मध्यप्रदेश विधान सभा
प्रश्नोत्तर-सूची
फरवरी-मार्च
2017 सत्र
बुधवार, दिनांक 01 मार्च 2017
भाग-1
तारांकित
प्रश्नोत्तर
छात्रावास
भवन का निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
1. ( *क्र. 662 ) श्रीमती नंदनी मरावी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला जबलपुर अंतर्गत मॉडल स्कूल कुण्डम के छात्रावास की स्वीकृति कब प्रदान की गई। स्वीकृति का दिनांक, प्राक्कलन की प्रति, स्वीकृत नक्शे की प्रति, कार्य की लागत, एजेन्सी के नाम सहित विवरण उपलब्ध करायें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुरूप कितना कार्य हो चुका है, कितना शेष है और क्यों? यह भी बतायें कि शेष कार्य कब तक पूरा कर लिया जावेगा? (ग) प्रश्नांश (क) छात्रावास के द्वितीय एवं तृतीय स्तर के काम अभी तक क्यों नहीं कराये गये? किसके द्वारा कराया जाना है एवं कब तक कराये जावेंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जिला जबलपुर अंतर्गत मॉडल स्कूल कुण्डम से संलग्न कोई छात्रावास वर्तमान में स्वीकृत नहीं है। अपितु लोक शिक्षण संचालनालय भोपाल के पत्र क्रमांक-लो.शि.सं./आर.एम.एस.ए./प्रशा.स्वी/62/2010/341, भोपाल दिनांक 04.10.2010 द्वारा बालिका छात्रावास कुण्डम हेतु प्रशासकीय स्वीकृति राशि रू. 38.00 लाख स्वीकृति दिनांक 04.10.2010 जारी की गई थी। कार्य की लागत राशि रू. 44.50 लाख है। इस कार्य की एजेंसी परियोजना क्रियान्वयन इकाई जबलपुर है। इस कार्य के प्राक्कलन की प्रति संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' एवं नक्शे की प्रति संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में प्रशासकीय स्वीकृति के अनुरूप समस्त कार्य दिनांक 07.06.2012 को पूर्ण हो चुके हैं। विस्तार शेष है। (ग) भारत शासन से स्वीकृत राशि के अनुरूप कार्य कराया जा चुका है। विस्तार राज्य बजट में राशि की उपलब्धता पर निर्भर करता है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
जबलपुर जिलान्तर्गत संचालित छात्रावास
[आदिम जाति कल्याण]
2. ( *क्र. 845 ) श्री अशोक रोहाणी : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जबलपुर जिले में आदिम जाति कल्याण/जनजाति कल्याण के कौन-कौन से छात्रावास संचालित हैं? इनमें से कौन-कौन से छात्रावास किराये के भवनों में संचालित हैं? इन छात्रावासों में कितना स्टाफ स्वीकृत व पदस्थ है? (ख) किन-किन अधीक्षकों के पास एक से अधिक छात्रावासों का प्रभार कब से है एवं क्यों? कौन-कौन अधीक्षक मुख्यालय स्थित छात्रावास में निवासरत नहीं हैं एवं क्यों? सूची दें। (ग) प्रश्नांकित किन-किन छात्रावासों में छात्र/छात्राओं की सुरक्षा व्यवस्था, खानपान व आवास संबंधी क्या-क्या सुविधाएं हैं एवं कौन-कौन सी बुनियादी सुविधाएं नहीं हैं एवं क्यों? इन छात्रावासों में सामग्री की खरीदी निर्माण व मरम्मत कार्य पर कितनी-कितनी राशि व्यय हुई? वर्ष 2013-14 से 2016-17 तक की जानकारी दें। (घ) प्रश्नांकित कौन-कौन से छात्रावास अत्यधिक जर्जर/खण्डहर व कमजोर हो गये हैं? इनकी मरम्मत व पुनर्निर्माण न कराने का क्या कारण है? विधानसभा क्षेत्र केंट के तहत स्थित किन-किन छात्रावासों का निरीक्षण कब-कब किन-किन अधिकारियों ने किया है एवं कहाँ-कहाँ पर कौन-कौन सी अनियमितताएं/अव्यवस्था पाई गईं हैं एवं तत्संबंध में कब किस पर क्या कार्यवाही की गई ? वर्ष 2014-15 से 2016-17 तक की जानकारी दें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ई'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। स्थानीय एवं नगरीय निकायों से पद पूर्ति न होने के कारण एवं शिक्षा विभाग से शिक्षक न मिलने के कारण छात्रावासों के सुचारू रूप से संचालन हेतु अधीक्षकों को एक से अधिक छात्रावासों का प्रभार दिया गया है। केवल अतिरिक्त प्रभार वाले अधीक्षक छात्रावास मुख्यालय में निवास नहीं करते हैं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) विभागीय छात्रावासों में छात्र-छात्राओं को निःशुल्क आवास, विद्युत, पानी, भोजन, बिस्तर सामग्री, पलंग एवं सुरक्षा हेतु चौकीदार की व्यवस्था सहित सभी बुनियादी सुविधायें उपलब्ध हैं। शेष जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' अनुसार है। (घ) प्रश्नांकित छात्रावासों में से कोई भी छात्रावास जर्जर/खण्डहर व कमजोर नहीं है। विधानसभा क्षेत्र केंट के अन्तर्गत किसी प्रकार की अनियमितता एवं अव्यवस्था नहीं पाई गई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जिला चिकित्सालय में डॉक्टरों की पदस्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
3. ( *क्र. 1630 ) श्री अंचल सोनकर : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला चिकित्सालय जबलपुर में कुल कितने डॉक्टर किस-किस विभाग में कब से पदस्थ हैं? कितने पद किस-किस विभाग के रिक्त हैं? पदस्थ डॉक्टरों की सूची नाम एवं विभाग सहित बतावें। (ख) क्या जिला चिकित्सालय में आने वाले मरीजों में से अधिकांश मरीजों को नेताजी सुभाष चंद्र बोस चिकित्सालय अथवा निजी अस्पतालों में भेज दिया जाता है एवं जिला चिकित्सालय में मामूली तौर पर बीमार मरीजों को भर्ती कर दिन में एक बार दवा प्रदाय कर बिना स्वास्थ्य लाभ लिये अस्पताल से मुक्त कर दिया जाता है? यदि हाँ, तो क्या शासन ने कभी इस संबंध में जाँच की कि माह में कितने मरीजों को जिला चिकित्सालय से अन्य अस्पतालों के लिये रेफर किया जाता है? (ग) क्या जिला चिकित्सालय जबलपुर में बीमारी से संबंधित प्रत्येक विभाग के डॉक्टर पदस्थ नहीं हैं? यदि नहीं हैं तो क्या शासन डॉक्टरों की पदस्थापना कर आम जनता को लाभ पहुंचाने का प्रयास करेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि पदस्थ हैं तो फिर मरीजों को अन्यत्र अस्पतालों में रेफर करने का औचित्य क्या है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। विशेषज्ञों की अत्यधिक कमी के कारण शत-प्रतिशत पद पूर्ति नहीं है। (ख) जी नहीं, केवल गंभीर मरीजों, जिनकी चिकित्सा सुविधा जिला चिकित्सालय में उपलब्ध नहीं है, उन्हें नेताजी सुभाषचन्द्र बोस चिकित्सालय रेफर किया जाता है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं, पर्याप्त मात्रा में चिकित्सक उपलब्ध हैं। चिकित्सा महाविद्यालय एवं संबद्ध चिकित्सालयों (टरशरी रेफरल सेन्टर) में जिला चिकित्सालय स्तर (सेकन्डरी रेफरल सेन्टर) की संस्था से अधिक सुविधाएं उपलब्ध होती हैं, अतः गंभीर मरीज को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध हों, इस हेतु गंभीर मरीजों को नेताजी सुभाषचन्द्र बोस चिकित्सालय में रेफर किया जाता है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
राशि वितरण में अनियमितता
[अनुसूचित जाति कल्याण]
4. ( *क्र. 1967 ) श्रीमती उमादेवी लालचंद खटीक : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला दमोह में वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में अ.जा. तथा अ.ज.जा. बस्ती विकास से आदिम जाति कल्याण विभाग द्वारा किस-किस ग्राम पंचायत को कितनी-कितनी राशि, किस कार्य हेतु प्रदाय की गई? जिला दमोह में उक्त तीन वर्षों में कितना-कितना आवंटन प्राप्त हुआ था? (ख) म.प्र. शासन अ.जा. विभाग में उक्त राशि वितरण के क्या नियम हैं? नियमावली की एक सत्यप्रति उपलब्ध करावें। (ग) क्या उक्त राशि वितरण में जिला संयोजक अ.जा. दमोह द्वारा भेदभावपूर्ण वितरण किया जाता है तथा लेन-देन की शिकायतें भी प्राप्त हो रही हैं? उक्त वर्षों में प्रदाय राशि के कार्यों की जाँच हेतु समिति बनाकर जाँच कर दोषियों पर कार्यवाही की? समय-सीमा सहित जानकारी उपलब्ध करावें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) पंचायत संबंधी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। तीन वर्षों में प्राप्त आवंटन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘स’ अनुसार है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मुख्यमंत्री राज्य बीमारी सहायता में स्वीकृत राशि का भुगतान
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
5. ( *क्र. 2895 ) श्रीमती अनीता नायक : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) टीकमगढ़ जिले में कैंसर के कितने प्रकरण वर्ष 2016-17 में प्राप्त हुये? कितने स्वीकृत हुये, कितने लंबित हैं। (ख) क्या टीकमगढ़ जिले में बजट के अभाव में रोगियों को सहायता तो स्वीकृत कर दी गई है, किंतु बजट न होने से राशि संबंधित अस्पताल को नहीं पहुँचाई गई है, जिससे गरीब रोगियों का इलाज नहीं हो पा रहा है? (ग) शासन द्वारा कब तक बजट उपलब्ध कराकर गंभीर बीमारी के रोगियों को इलाज हेतु राशि अस्पताल को रिलीज की जावेगी।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) टीकमगढ़ जिले में वर्ष 2016-17 में कैंसर रोग के कुल 92 प्रकरण प्राप्त हुए, 92 प्रकरण स्वीकृत किये गये, जिसमें 09 प्रकरण बजट के अभाव में भुगतान हेतु लंबित हैं। (ख) टीकमगढ़ जिले में 83 प्रकरणों की राशि संबंधित अस्पतालों को जारी कर दी गई है। शेष 09 प्रकरण बजट के अभाव में भुगतान हेतु लंबित हैं। (ग) मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, जिला टीकमगढ़ द्वारा राशि रूपये 60.00 लाख की मांग की गई थी, जिसमें से राशि रूपये 17.00 लाख का बजट प्रदाय किया गया। जो कि संबंधित अस्पताल को रोगियों के इलाज हेतु जारी किया गया है, शेष प्रकरणों में बजट आवंटन उपरान्त राशि संबंधित अस्पतालों को जारी की जावेगी।
मंदसौर जिले में अध्यापकों के वेतन में विसंगति
[स्कूल शिक्षा]
6. ( *क्र. 2688 ) श्री यशपालसिंह सिसौदिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मंदसौर जिले के समस्त अध्यापकों को छठवें वेतनमान का लाभ, प्रश्न दिनांक तक दे दिया गया है? (ख) अध्यापकों को 1 जनवरी 2016 से छठवें वेतनमान के एरियर का भुगतान उक्त जिले में कर दिया गया है? संकुलवार जानकारी देवें। (ग) क्या जिले के सभी विद्यालयों के छठवें वेतनमान के निर्धारण का अनुमोदन "स्थानीय निधि संपरीक्षा" से करा लिया गया है? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) क्या प्रश्न दिनांक तक वेतन, एरियर्स या अन्य भुगतान वसूला जा चुका है? कर्मचारी सहित जानकारी दें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) वेतन निर्धारण के फलस्वरूप देय एरियर्स तीन समान किश्तों में तीन वर्षों में वित्तीय वर्ष 2017-18 से दिये जाने के निर्देश हैं। मन्दसौर जिले में एरियर का भुगतान नहीं किया गया है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं। प्रक्रिया प्रचलन में है। (घ) जी नहीं। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अस्पताल परिसर का सीमांकन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
7. ( *क्र. 2781 ) श्रीमती झूमा सोलंकी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भीकनगांव विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत भीकनगांव तहसील अन्तर्गत अस्पताल परिसर के सीमांकन हेतु रोगी कल्याण समिति या अस्पताल के प्रभारी अधिकारी द्वारा कोई आवेदन/निवेदन किया गया है? यदि हाँ, तो आवेदन प्रस्तुति की दिनांक क्या थी तथा वर्तमान तक क्या कार्यवाही की गई? (ख) क्या अस्पताल की शासकीय भूमि पर अतिक्रमण निजी उद्योगपतियों द्वारा किया जा रहा है तथा जिसके बारे में बार-बार रोगी कल्याण समिति की बैठक में ध्यानाकर्षण कराया जाता है? (ग) यदि हाँ, तो उस पर वर्तमान तक क्या कार्यवाही की गई? क्या भविष्य में अतिशीघ्र अस्पताल परिसर का सीमांकन कर दिया जावेगा? यदि हाँ तो कब तक?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। रोगी कल्याण समिति की बैठक के दौरान दिनांक 04/09/2014 को निवेदन किया गया था। सीमांकन का कार्य किया जा चुका है। (ख) जी नहीं। जी नहीं। (ग) प्रश्नांश (ख) के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। उत्तर प्रश्नांश (क) के अनुरूप।
स्कूलों में परिवहन सुविधा
[स्कूल शिक्षा]
8. ( *क्र. 1877 ) श्री हेमन्त विजय खण्डेलवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या निश्िचत दूरी पर स्कूल खोले जाकर परिवहन सुविधा उपलब्ध कराए जाने का प्रस्ताव विचाराधीन है? (ख) क्या इस योजना को बैतूल जिले अंतर्गत विकासखण्ड बैतूल एवं भीमपुर में प्रारंभ करने का निर्णय लिया गया है? (ग) यदि हाँ, तो कब से योजना प्रारंभ की जा रही है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) प्रस्ताव परीक्षणाधीन है। (ख) बैतूल जिले के चयनित संकुलों का प्रस्ताव परीक्षणाधीन है। (ग) प्रकरण परीक्षणाधीन है। अत: समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
शिक्षकों का अनुचित अटैचमेंट
[स्कूल शिक्षा]
9. ( *क्र. 1528 ) श्रीमती ममता मीना : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा अधिनियम 2009 की कण्डिका 27 में शिक्षकों से गैर शैक्षणिक कार्य नहीं कराये जाने संबंधी प्रावधान हैं? यदि हाँ, तो आदेश की प्रति उपलब्ध करावें? (ख) गुना जिले में जिला मुख्यालय पर जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय/जिला शिक्षा केन्द्र/वि.ख. शिक्षा अधिकारी कार्यालय एवं वि.ख. स्त्रोत समन्वयक कार्यालयों में कितने शिक्षक पदस्थ हैं? इन कार्यालयों में कौन सा शैक्षणिक कार्य संपादित होता है? (ग) प्रश्नांश (ख) में वर्णित कार्यालयों में पदस्थ शिक्षकों को कब तक अपने मूल पदस्थी स्थान पर भारमुक्त किया जावेगा तथा अनुचित रूप से उक्त कार्यालयों में अटैचमेंट करने वाले अधिकारियों के विरूद्ध क्या कार्यवाही की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ, संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) वर्तमान में कोई शिक्षक पदस्थ नहीं है। इन कार्यालयों में शैक्षणिक/प्रशासकीय एवं तत्संबंधी योजनाओं आदि के कार्य किये जाते हैं। (ग) प्रश्नांश (ख) के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
स्थानान्तरण नीति का पालन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
10. ( *क्र. 647 ) श्री रामनिवास रावत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. शासन सामान्य प्रशासन विभाग भोपाल द्वारा जारी स्थानान्तरण नीति वर्ष 2016-17 क्रमांक एफ 6-1/2016/एक/9, दिनांक 02/08/16 एवं वर्ष 2015-16 क्रमांक एफ 6-1/2015/एक/9, दिनांक 15/04/15 के बिंदु क्रमांक 8 की कंडिका 7 में कार्यपालिक तृतीय श्रेणी कर्मचारियों/अधिकारियों को एक ही स्थान पर तीन वर्ष की अवधि पूर्ण कर लेने पर स्थानान्तरण कर दिये जाने का उल्लेख है? (ख) ग्वालियर, चम्बल संभाग के सभी जिलों में खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग में ऐसे कितने खाद्य सुरक्षा अधिकारी/खाद्य निरीक्षक (कार्यपालिक तृतीय श्रेणी अधिकारी/कर्मचारी) कार्यरत हैं, जिन्हें एक ही स्थान पर अपनी प्रथम पदस्थापना दिनांक से वर्तमान तक तीन वर्ष या पाँच वर्ष से अधिक का समय हो गया है? अधिकारियों/कर्मचारियों के नाम, पदस्थापना एवं कार्यकाल की अवधि सहित जिलेवार सूची दें? (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार एक ही पदस्थापना स्थल पर तीन वर्ष से अधिक समय से पदस्थ अधिकारियों/कर्मचारियों को प्रश्नांश (क) की नीति अनुसार स्थानान्तरण नहीं करने के क्या कारण हैं? कब तक ऐसे अधिकारियों/कर्मचारियों को शासन नीति अनुसार स्थानांतरित कर दिया जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी नहीं, स्थानांतरण नीति में अधिकतम 20% स्थानान्तरण के निर्देश होने से 3 वर्ष से अधिक अवधि के खाद्य सुरक्षा अधिकारी एक ही जिले में पदस्थ हैं। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
कम्प्यूटर उपकरण खरीदी में अनियमितता
[स्कूल शिक्षा]
11. ( *क्र. 451 ) श्री सतीश मालवीय : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) उज्जैन जिला परियोजना समन्वयक द्वारा कार्यालयीन व विकासखण्ड स्तर पर जनवरी 2016 से जनवरी 2017 तक नवीन कम्प्यूटर, फोटोकॉपी मशीन, प्रिंटर, लैपटॉप एवं स्केनर आदि की खरीदी पर कितनी राशि व्यय की गई? सामग्रीवार कन्फ्रीग्रेशन एवं मॉडल नम्बर सहित, बिलवार, कीमत सहित जानकारी उपलब्ध करवाएं। (ख) क्या प्रश्नांश (क) दर्शित उपकरण की खरीदी में राज्य शिक्षा केन्द्र के निर्देश अनुसार क्रय करने से पूर्व गठित क्रय समिति से अनुमोदन के पश्चात् खरीदी की गई है? यदि हाँ, तो बैठक की दिनांक, बैठक में उपस्थित अधिकारियों के नाम एवं बैठक की प्रति उपब्लध करवाएं? (ग) क्या उज्जैन जिला परियोजना समन्वयक द्वारा बिना क्रय समिति से अनुमोदन लिये भारी मात्रा में खरीदी की गई है? यदि हाँ, तो नियम विरुद्ध खरीदी कर शासन को क्षति पहुँचाने वाले जिला परियोजना समन्वयक पर शासन द्वारा राज्य स्तरीय समिति से जाँच कराकर कब तक कार्यवाही की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) उज्जैन जिला परियोजना समन्वयक द्वारा कार्यालयीन व विकासखण्ड स्तर पर जनवरी, 2016 से जनवरी 2017 तक नवीन कम्प्यूटर, फोटोकॉपी मशीन, लेपटॉप की खरीदी नहीं की गई है। उक्त अवधि में प्रिन्टर एवं स्केनर आदि खरीदी पर 90,130.00 (राशि रू. नब्बे हजार एक सौ तीस मात्र) की राशि व्यय की गई है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जिले द्वारा म.प्र. भण्डार क्रय नियमों का पालन करते हुए क्रय की कार्यवाही की गयी। विभागीय क्रय समिति के अनुमोदन के पश्चात् खरीदी की गयी है। विभागीय क्रय समिति के सदस्य तत्कालीन जिला परियोजना समन्वयक श्री देवेन्द्र आर्य, सहायक परियोजना समन्वयक (वित्त), श्री बी.एस. राणावत एवं जिला पंचायत के शिक्षा प्रभारी श्री अरूण नागर ने दिनांक 17.03.2016 को बैठक में उक्त सामग्री क्रय का अनुमोदन किया। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) प्रश्नांश (ख) के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
दवाएं एवं सर्जिकल उपकरणों का क्रय
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
12. ( *क्र. 2797 ) श्री अरूण भीमावद : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शाजापुर जिले में वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में कितनी दवाएं, सर्जिकल उपकरण एवं अन्य सामग्री मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा क्रय की गईं? प्राप्त आवंटन, सप्लाई दिनांक, प्रदायकर्ता फर्म का नाम, फर्म पार्टनर/प्रोपराइटर का नाम सहित देवें? (ख) किन-किन फर्मों ने टेण्डर भरे, जमा टेण्डरों की स्वीकृति एवं टेण्डर के लिए दिये गये विज्ञापनों का विवरण देवें? (ग) क्या क्रय की गई दवाओं एवं सर्जिकल उपकरणों एवं अन्य सामग्रियों को क्रय करने के पश्चात् स्टॉक पंजी में दर्ज किया गया है? यदि हाँ, तो क्या उनको वितरण पंजी में अद्यतन किया गया है? (घ) जिला प्रशासन ने जिला चिकित्सालय के भण्डार कक्ष के औचक निरीक्षण के उपरांत क्या-क्या अनियमितताएं पाईं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) शाजापुर जिले में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में क्रय की गई दवाएं, सर्जिकल उपकरण एवं अन्य सामग्री, प्राप्त आवंटन, सप्लाई दिनांक, सप्लाई फर्म के नाम की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। कार्यालय द्वारा नियमानुसार सीधे फर्म व राज्य शासन के उपक्रम को ही आदेश दिये जाते हैं। प्रोपराइटर को कोई आदेश नहीं दिये जाते हैं। (ख) जिन फर्मों ने टेण्डर भरे, जमा टेण्डरों की स्वीकृति एवं टेण्डर के लिए दिये गये विज्ञापनों का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है। (ग) जी हाँ। (घ) जिला प्रशासन द्वारा जिला भंडार के औचक निरीक्षण में पाई गई अनियमितताओं एवं उसका पालन प्रतिवेदन पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘स’ अनुसार है।
सतना में त्वरित चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराई जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
13. ( *क्र. 1673 ) श्री शंकर लाल तिवारी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सतना में आये दिन होने वाली सड़क दुर्घटनाओं में त्वरित चिकित्सा सुविधा उपलब्ध न होने के कारण कई युवा दम तोड़ रहे हैं? प्रश्नकर्ता द्वारा कई बार ट्रामा केयर यूनिट की मांग करने पर भी सतना में इसके बनने की गति इतनी धीमी है कि यह सालों में भी तैयार नहीं हो पायेगा? यही हाल नर्सिंग स्कूल भवन, हॉस्टल का भी है? (ख) कब तक शासन सतना में ट्रामा केयर सेंटर एवं नर्सिंग स्कूल भवन, हॉस्टल प्रारंभ करा देगा? (ग) विलम्ब के लिए दोषी ठेकेदार एवं अधिकारियों के विरूद्ध कब तक अनुशासनात्मक कार्यवाही कर दी जायेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी नहीं, जिला चिकित्सालय सतना में दुर्घटनाओं में घायल व्यक्तियों को समुचित उपचार उपलब्ध कराया जाता है, आज दिनांक तक ऐसे प्रकरणों में उपचार के अभाव में किसी घायल की मृत्यु नहीं हुई है। सतना जिले में ट्रामा यूनिट सेंटर का निर्माण कार्य 13वें वित्त आयोग अंतर्गत स्वीकृत हुआ था। दिनांक 31 मार्च, 2015 से उक्त योजना बंद होने पर राज्य मद से शेष कार्यों को पूर्ण करने हेतु पुनरीक्षित प्रशासकीय स्वीकृति राशि रुपये 399.69 लाख की दिनांक 10.02.2016 को जारी की गई। इस कारण कार्य की गति काफी प्रभावित हुई। नर्सिंग स्कूल भवन एवं हॉस्टल की स्वीकृति 4/2015 में जारी हुई थी। आवश्यक निर्माण हेतु भूमि विलंब से उपलब्ध होने के कारण यह कार्य 09/2016 में प्रारंभ हो सका। उक्त कार्य 03/2018 तक पूर्ण किये जाने का लक्ष्य है। वर्तमान में कार्य द्रुत गति से प्रगतिरत है। (ख) ट्रामा केयर सेंटर का भवन माह 06/2017 तक तथा जी.एन.एम. स्कूल एवं हॉस्टल का निर्माण 03/2018 तक पूर्ण करने का लक्ष्य है। (ग) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में विलंब हेतु ठेकेदार एवं अधिकारी जिम्मेदार नहीं हैं। अतः शेष का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
बस्ती विकास योजनान्तर्गत निर्माण कार्य
[आदिम जाति कल्याण]
14. ( *क्र. 2561 ) श्रीमती शकुन्तला खटीक : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) परि.अता.प्रश्न संख्या 82 (क्रमांक 1203) दिनांक 09 दिसम्बर 2016 के भाग (ख) के उत्तर में योजनान्तर्गत जनपद पंचायतवार आवंटन प्राप्त नहीं होता है। वित्तीय वर्ष 2014-15 से अक्टूबर 2016 तक शिवपुरी जिले को राशि रूपये 438.58 का आवंटन प्राप्त हुआ बताया है। (ख) यदि हाँ, तो उपरोक्त प्राप्त आवंटन में से जिला शिवपुरी में अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति बस्तियों में कहाँ-कहाँ, किस-किस प्रकार के निर्माण कार्य हुये व निर्माण कार्यों के अनुशंसित प्रस्ताव किन-किन जनप्रतिनिधियों द्वारा जिला प्रशासन (अ.जा.) को प्राप्त हुये, की प्रति सहित जानकारी दी जावे? (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में कार्य विवरण, कार्यस्थल का नाम, पता, स्वीकृत राशि, क्रियान्वयन ऐजेन्सी, मांग संख्या, लेखा शीर्ष, कार्य पूर्ण निर्धारित अवधि, कार्य आदेश दिनांक, कार्य पूर्ण दिनांक सहित जानकारी दी जावे? (घ) क्या प्रश्नांश (ग) में उल्लेखित सभी कार्य समय अवधि में पूर्ण हो चुके हैं, अथवा नहीं तो क्यों व कब तक पूर्ण करा दिये जायेंगे?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) अनुसूचित जाति बस्तियों में कराये गये कार्यों का विवरण एवं जनप्रतिनिधियों के प्रस्तावों की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। अनुसूचित जाति बस्ती विकास मद से अनुसूचित जनजाति बस्ती में कार्य कराने का प्रावधान नहीं है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (घ) जी नहीं। 95 कार्य पूर्ण हो चुके हैं, 47 कार्य अपूर्ण हैं। इनमें से वर्ष 2014-15 के 16 कार्य प्रारंभ नहीं हुए हैं। संबंधित ग्राम पंचायतों से वसूली की कार्यवाही की जा रही है। वर्ष 2016-17 के शेष 31 कार्य 02 माह में पूर्ण कर लिये जायेंगे।
सिविल हॉस्पिटल जावरा में स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
15. ( *क्र. 2353 ) डॉ. राजेन्द्र पाण्डेय : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या दिनांक 18 जनवरी, 2017 को सिविल हॉस्पिटल एवं महिला चिकित्सालय जावरा का मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी एवं चिकित्सा अधिकारियों के साथ ही प्रश्नकर्ता की उपस्थिति में दोनों चिकित्सालयों की व्यवस्थाओं, आवश्यकताओं, पूर्ण, अपूर्ण कार्यों के साथ ही विभागीय योजनाओं के क्रियान्वयन के संबंध में निरीक्षण किया गया था? (ख) यदि हाँ, तो क्या निरीक्षण के दौरान महिला चिकित्सालय के नवीन भवन की आवश्यकता को सिविल हॉस्पिटल जावरा की रिक्त भूमि पर बनाए जाने के साथ ही नवीन ओ.पी.डी. भवन के पास इमरजेंसी वार्ड एवं बाउंड्रीवॉल तथा प्राईवेट रूम, वार्डों की मरम्मत, रंग रोगन, रख-रखाव इत्यादि आवश्यकताएं पाई गईं? (ग) यदि हाँ, तो क्या इसी के साथ पोषण पुनर्वास केन्द्र (एन.आर.सी.) एवं जननी सुरक्षा योजना क्रियान्वयन की जानकारी ली गई? तो बताएं कि वर्ष 2013-14 से लेकर प्रश्न दिनांक तक कितना बजट प्राप्त होकर किन-किन कार्यों पर कितना व्यय हुआ? नामवार, कार्यवार, बताएं। (घ) निरीक्षण में पाई भवन आवश्यकताओं मरम्मत कार्यों के साथ सफाई व्यवस्था एवं मेडिसिन तथा सर्जिकल विशेषज्ञ (एम.डी. - एम.एस.) की तथा प्रश्नांश (क) से लेकर (घ) तक में उल्लेखित कमियों एवं आवश्यकताओं को कब तक दूर किया जाएगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। ऐसा उस दिनांक को माननीय प्रश्नकर्ता महोदय तथा उपस्थित अधिकारियों का अभिमत था। (ग) जी हाँ। शेष प्रश्नांश की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' एवं ''ब'' अनुसार है। (घ) महिला चिकित्सालय को सिविल हॉस्पिटल के रिक्त भूमि पर बनाये जाने के संबंध में तथा मरम्मत कार्यों के प्रस्ताव जिले से प्राप्त होने पर परीक्षण उपरांत आवश्यकता अनुसार उपलब्ध वित्तीय संसाधनों की स्थिति अनुसार निर्माण, मरम्मत के संबंध में स्वीकृति की कार्यवाही की जा सकेगी। साफ-सफाई की कमियों को शीघ्र ही दूर करा दिया जायेगा। प्रदेश में विशेषज्ञों की अत्यधिक कमी है एवं विशेषज्ञों के पद शत-प्रतिशत पदोन्नति से भरे जाने का प्रावधान होने के कारण पदपूर्ति नहीं की जा सकी है। मेडिसिन एवं सर्जरी योग्यता के चिकित्सकों की उपलब्धता होने पर पदस्थापना की कार्यवाही की जाना संभव हो सकेगी। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
उपकरण की खरीदी
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
16. ( *क्र. 1794 ) श्री अनिल फिरोजिया : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र तराना में मरीजों के उपचार हेतु प्रदाय एक्स-रे मशीन की क्या स्थिति है? क्या उसका उपयोग हो रहा है? यदि नहीं, तो क्या कारण है? (ख) क्या प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र तराना हेतु नवीन एक्स-रे मशीन स्वीकृत की गई है? यदि हाँ, तो किस दिनांक को किसके आदेश से? (ग) क्या उक्त एक्स-रे मशीन सी.एम.एच.ओ. द्वारा क्रय की जानी थी? यदि हाँ, तो अब तक क्रय न किये जाने का क्या कारण है? उक्त मशीन कब तक क्रय कर ली जावेगी? (घ) मशीन समयावधि में क्रय न करने हेतु कौन दोषी है? क्या विभाग दोषी के विरूद्ध कोई कार्यवाही करेगा? यदि हाँ, तो कब तक? (ड.) क्या प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र तराना में एक्स-रे मशीन संचालन हेतु प्रशिक्षित स्टाफ उपलब्ध है? यदि नहीं, तो स्टाफ कब तक उपलब्ध करा दिया जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) एक्स-रे मशीन दिनांक 13/07/2015 से खराब है। जी नहीं, मशीन खराब होने के कारण। (ख) जी हाँ, विभाग के आदेश दिनांक 18/01/2016 के द्वारा। (ग) जी हाँ। परीक्षण किया जा रहा है। यथासंभव शीघ्र। (घ) प्रकरण का परीक्षण किया जायेगा तथा गुण-दोष के आधार पर आवश्यक कार्यवाही की जायेगी। यथासंभव शीघ्र। (ड.) जी हाँ। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
कन्या हाई स्कूल के लिए आवंटित भूमि पर अतिक्रमण
[स्कूल शिक्षा]
17. ( *क्र. 2370 ) श्री दिव्यराज सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विकासखण्ड जवा के डभौरा में कन्या हाई स्कूल के नवीन भवन निर्माण हेतु सन् 2013-14 में कलेक्टर रीवा के द्वारा भूमि आवंटित की गई थी, जिसका खसरा क्रमांक 1157 है तथा रकबा 0.368 है? जिसमें भवन निर्माण हेतु प्रथम तकनीकी रिपोर्ट में भूमि को दलदल बताया गया था? (ख) क्या इसके उपरांत पुनः उक्त भूमि के परीक्षण हेतु समिति गठित की गई, जिसके प्रतिवेदन में उक्त भूमि भवन निर्माण हेतु उपयुक्त पायी गई? उक्त भूमि में पहुंच मार्ग हेतु डभौरा के श्री गणेश गुप्ता के द्वारा मुख्य मार्ग से भूमि तक पहुंच मार्ग के लिये दान स्वरुप भूमि भी उपलब्ध कराने की सहमति दे दी, किन्तु क्या कारण है कि उक्त भूमि पर 4 वर्ष बीत जाने के पश्चात् भी निर्माण कार्य प्रारंभ नहीं किया जा सका? विभाग द्वारा भवन निर्माण की क्या समय-सीमा निर्धारित की गई है? (ग) क्या उक्त भूमि में अवैध अतिक्रमण किया गया है? यदि हाँ, तो विभाग के द्वारा उक्त अतिक्रमण को हटाने के संबंध में क्या कार्यवाही की गई है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। कार्य समय पर प्रारम्भ न होने एवं लागत में वृद्धि होने से इस स्कूल के कार्य की स्वीकृति भारत शासन द्वारा 2016-17 में निरस्त कर दी गई है। आगामी समय-सीमा अभी निर्धारित नहीं की गई है। (ग) जी हाँ। अतिक्रमण हटाने हेतु समय-समय पर कलेक्टर को पत्र लिखा गया है।
शिक्षक/अध्यापक/संविदा शाला शिक्षकों का प्रशिक्षण
[स्कूल शिक्षा]
18. ( *क्र. 1100 ) श्री बलवीर सिंह डण्डौतिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) म.प्र. शासन स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा स्कूलों में कार्यरत अप्रशिक्षित सहा. शिक्षक/अध्यापक/संविदा शाला शिक्षक को प्रशिक्षण हेतु भेजने के क्या नीति, नियम प्रचलन में हैं? जानकारी देवें। (ख) कार्यालय जिला शिक्षा अधिकारी मुरैना द्वारा जनवरी 2015 से जनवरी 2017 तक कितने अप्रशिक्षित शिक्षकों को प्रशिक्षण हेतु अनुमति दी गई, की जानकारी शिक्षक का नाम/अध्यापक का नाम/संविदा शिक्षक का नाम, वर्ष, दिनांक, शाला का नाम, नियुक्ति आदेश दिनांक, प्रशिक्षण हेतु वर्ष दिनांक जनपद/जिला पंचायतवार दी जावे। (ग) क्या डी.ई.ओ. कार्यालय मुरैना द्वारा प्रशिक्षण सूची भेजने में वरीयता की अनदेखी की गई है? यदि हाँ, तो क्यों? क्या इस प्रकरण की जाँच उच्च अधिकारियों द्वारा प्रश्नकर्ता विधायक के समक्ष की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) शासकीय शालाओं में कार्यरत अप्रशिक्षित सहायक शिक्षक/अध्यापक/संविदा शाला शिक्षक को प्रशिक्षण हेतु प्रवेश नीति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ग) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
हायर सेकेण्डरी एवं हाई स्कूलों में अतिथि शिक्षकों की भर्ती
[स्कूल शिक्षा]
19. ( *क्र. 2947 ) श्री चन्द्रशेखर देशमुख : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मुलताई विधानसभा क्षेत्र के हायर सेकेण्डरी एवं हाई स्कूलों में वर्ष 2015-16, 2016-17 में अतिथि शिक्षकों की नियुक्तियाँ की गईं हैं? यदि हाँ, तो विषयवार अतिथि शिक्षकों की संख्या, अतिथि शिक्षकों के नामों सहित दें। (ख) क्या शासन द्वारा 26 जून 2016 (लोक शिक्षण संचनालय) के माध्यम से अतिथि शिक्षकों की भर्ती संबंधी दिशा-निर्देश दिये गये थे? यदि हाँ, तो दिशा-निर्देशों एवं आदेशों की छायाप्रतियां दें। (ग) प्रश्नांश (ख) के अनुसार क्या प्राप्त दिशा निर्देशों एवं आदेशों के तहत ही यह नियुक्तियाँ की गयी हैं? यदि हाँ, तो क्या "बालक उत्कृष्ट विद्यालय मुलताई" में भी इनका पालन किया गया है? यहाँ पर नियुक्त सभी अतिथि शिक्षकों की जानकारी प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में दें। (घ) यदि "बालक उत्कृष्ट विद्यालय मुलताई" में प्रश्नांश (ख) के अनुसार प्राप्त दिशा निर्देशों एवं आदेशों का पालन नहीं किया गया, तो क्या इसके लिये जवाबदार अधिकारियों या कर्मचारियों पर कार्यवाही की गयी? यदि नहीं, तो इन दोषी अधिकारियों या कर्मचारियों पर कब तक कार्यवाही की जायेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। शेषांश की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'एक' अनुसार है। (ख) शासन आदेश क्र. एफ 44-15/2010/20-2 दिनांक 30/06/16 से निर्देश जारी किये गये हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'दो' अनुसार है। (ग) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'एक' अनुसार है। (घ) शासन आदेश दिनांक 30.06.16 के दिशा-निर्देशों के अंतर्गत बालक उत्कृष्ट उ.मा.वि. मुलताई के अतिथि शिक्षकों की व्यवस्था की गई। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
एन.आर.एच.एम. योजनान्तर्गत अपात्र अभ्यर्थियों का चयन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
20. ( *क्र. 1346 ) डॉ. गोविन्द सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वर्ष 2015 में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एन.आर.एच.एम.) के तहत प्रदेश में विकासखण्ड लेखापाल के पदों पर संविदा नियुक्ति हेतु प्रतियोगी परीक्षा आयोजित की गई थी? (ख) यदि हाँ, तो उक्त प्रश्नांश के परिप्रेक्ष्य में कितने अभ्यर्थी परीक्षा में सम्मिलित हुए थे, उनमें से कितने अभ्यर्थियों का चयन किया गया एवं कितने अभ्यर्थियों को अपात्र घोषित किया गया? (ग) क्या अपात्र किए गए अभ्यर्थियों की सूची (क्रमांक 1 से 37) में से सरल क्र. 3, 4, 5, 6, 7, 22, 30, 36 एवं 37 पर दर्शित अभ्यर्थियों को विकासखण्ड लेखापाल के पद पर संविदा नियुक्ति प्रदान की गई है? (घ) यदि हाँ, तो अपात्र अभ्यर्थियों को नियुक्ति प्रदान किए जाने के क्या कारण हैं एवं क्या इसकी जाँच कराकर दोषी अधिकारी के खिलाफ कार्यवाही की जाएगी एवं नियम विरूद्ध नियुक्त अपात्र अभ्यर्थियों के नियुक्ति आदेश निरस्त किए जायेंगे? यदि नहीं, तो क्यों?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) कुल 80 अभ्यर्थी परीक्षा में सम्मिलित हुये। उनमें से 25 का चयन किया गया तथा 27 अपात्र घोषित किये गये। (ग) जी हाँ। (घ) एम.पी. ऑनलाईन द्वारा उपलब्ध कराई गयी अभ्यर्थियों की प्रावधिक सूची में अपात्र होने का कारण वांछित अनुभव नहीं होना दर्शाया था, लेकिन दस्तावेज परीक्षण में अभ्यर्थियों द्वारा वांछित दस्तावेज उपलब्ध कराये गये, तद्नुसार पात्र अभ्यार्थियों को नियुक्ति प्रदान की गई। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्वास्थ्य केन्द्र बल्देवगढ़/खरगापुर/पलेरा में चिकित्सकों के रिक्त पदों की पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
21. ( *क्र. 1736 ) श्रीमती चन्दा सुरेन्द्र सिंह गौर : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या खरगापुर विधान सभा क्षेत्र के स्वास्थ्य केन्द्र बल्देवगढ़, खरगापुर, पलेरा में शासन से स्वीकृत पदों अनुसार वर्तमान में डॉक्टरों की तैनाती नहीं है एवं शासन से स्वीकृत महिला चिकित्सक भी नहीं है तथा खरगापुर स्वास्थ्य केन्द्र केवल एक मात्र डॉक्टर के ऊपर ही चल रहा है? शासन से स्वीकृत पदों अनुसार रिक्त पदों की पूर्ति किये जाने हेतु विभाग द्वारा क्या योजना बनाई गई है तथा वर्तमान में किन-किन डॉक्टरों की तैनाती है? रिक्त पदों की पूर्ति कब तक कर दी जावेगी? यदि पूर्ति की जाना संभव नहीं है तो, कारण स्पष्ट करें। (ख) क्या बल्देवगढ़, खरगापुर, पलेरा में महिला डाक्टर ना होने के कारण क्षेत्र की महिलाओं को बाहर या जिला मुख्यालय पर इलाज कराने हेतु भटकना पड़ता है और कई बार इलाज के अभाव में मौतें भी हो जाती हैं तथा महिलाओं की मृत्यु होने पर शव विच्छेदन में भी महिला डॉ. न होने पर पुरूष डाक्टर द्वारा उक्त कार्य किया जाता है या जिला मुख्यालय भेजकर शव विच्छेदन हो पाता है? यदि हाँ, तो आम जन मानस की सुविधा को ध्यान में रखते हुये महिला डॉक्टरों की पूर्ति करायेंगे? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो कारण स्पष्ट करें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, बल्दवेगढ़, खरगापुर एवं पलेरा में विशेषज्ञों के पद स्वीकृत एवं प्रदेश में विशेषज्ञों की अत्यधिक कमी के कारण रिक्त हैं। स्त्रीरोग विशेषज्ञ का पद स्वीकृत एवं रिक्त है। खरगापुर में वैकल्पिक व्यवस्था सप्ताह में 02-02 दिवस हेतु पृथक-पृथक 02 चिकित्सकों की ड्यूटी लगाई गई है। पदस्थ चिकित्सकों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। पदपूर्ति हेतु विभाग निरंतर प्रयास कर रहा है, मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग के माध्यम से 1896 पदों हेतु साक्षात्कार की कार्यवाही प्रचलन में है, चयन सूची में उपलब्धता अनुसार पदस्थापना संबंधी कार्यवाही की जा सकेगी। निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है। (ख) बल्देवगढ़ में डॉ. शिवा राजावत बंधपत्र चिकित्सक कार्यरत हैं। सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, पलेरा में एस.बी.ए. प्रशिक्षित डॉ. फिरोजा बानो, आयुष चिकित्सक पदस्थ हैं तथा खरगापुर में चिकित्सकों की वैकल्पिक व्यवस्था की गई है। उपलब्ध चिकित्सकों द्वारा स्वास्थ्य सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं, गंभीर रोगियों को जिला चिकित्सालय में स्त्रीरोग विशेषज्ञों द्वारा उपचार की सुविधा प्रदान की जाती है। अभी तक शव विच्छेदन की समस्या पैदा नहीं हुई है। गंभीर या विवादित मामलों में पुलिस की मांग पर जिला स्तर पर पैनल बोर्ड का गठन कर शव विच्छेदन कराया जाता है।
रेडियोलॉजिस्ट की पदस्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
22. ( *क्र. 2742 ) श्री नारायण सिंह पँवार : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता के अता.प्रश्न क्रमांक 337, दिनांक 9 दिसम्बर 2016 के उत्तर की कंडिका (ख) में बताया गया था कि सिविल अस्पताल ब्यावरा में सोनोग्राफी मशीन एवं उसके संचालन हेतु तकनीशियन की सुविधा यथासंभव शीघ्र प्रदान कर दी जावेगी? (ख) क्या मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जिला राजगढ़ द्वारा पत्र क्र./स्थापना/2016/7285 राजगढ़ दिनांक 03.06.2016 से आयुक्त संचालनालय स्वास्थ्य सेवाएं मध्यप्रदेश भोपाल को अवगत कराते हुये सिविल अस्पताल ब्यावरा हेतु सोनोग्राफी मशीन क्रय किये जाने के आदेश प्रसारित किये गये हैं? (ग) संबंधित फर्म द्वारा सोनोग्राफी मशीन प्रदाय किये जाने हेतु अस्पताल पर रेडियोलॉजिस्ट या समकक्ष चिकित्सा अधिकारी के उपलब्धता की जानकारी चाही गई है। इस हेतु शीघ्र रेडियोलॉजिस्ट अथवा समकक्ष चिकित्सा अधिकारी की पदस्थापना आदेश जारी करने हेतु लिखा गया था? यदि हाँ, तो उक्त संबंध में प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही की गई? (घ) उपरोक्तानुसार क्या शासन रेडियोलॉजिस्ट की पदस्थापना सहित सोनोग्राफी मशीन स्थापित करने हेतु सभी आवश्यक कार्यवाही पूर्ण कर आमजन को सुविधा प्रदान करेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। उक्त आदेश निरस्त कर मध्यप्रदेश पब्लिक हेल्थ सर्विसेशन कर्पोरेशन लिमिटेड की दरों के अनुरूप नवीन आदेश क्रमांक-19384 दिनांक 30/11/2016 के द्वारा मेसर्स ब्लू. स्टार इन्जीनियरिंग एण्ड इले. लिमिटेड, मुंबई को जारी किया गया है। (ग) जी हाँ। सिविल अस्पताल ब्यावरा में डी.जी.ओ. चिकित्सक पदस्थ हैं तथा उनके नाम से सोनोग्राफी मशीन का लायसेंस जारी किया जा चुका है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) जी हाँ। यथासंभव शीघ्र।
मदरसा अनुदान के रूप में प्रदत्त राशि
[स्कूल शिक्षा]
23. ( *क्र. 3186 ) श्री रमेश पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विगत तीन वर्षों में बड़वानी जिले में कितने मदरसों को मान्यता दी गई एवं कितनी अनुदान राशि इन्हें प्रदत्त की गई? मदरसे का नाम, स्थान, अनुदान राशि सहित वर्षवार बतावें। (ख) बड़वानी जिले के अंतर्गत कितने मदरसों ने नवीन अनुदान हेतु आवेदन किया? उसमें से कितने अनुदान स्वीकृत/अस्वीकृत किये गये, की जानकारी मदरसावार देवें? (ग) क्या विभाग द्वारा अल्पसंख्यक छात्र-छात्राओं हेतु छात्रावास चलाये जा रहे हैं? यदि हाँ, तो बड़वानी जिलान्तर्गत संचालित छात्रावासों की सूची देवें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ख) जानकारी निरंक है। (ग) जी नहीं। ऐसा कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है।
शालाओं का उन्नयन
[स्कूल शिक्षा]
24. ( *क्र. 2646 ) श्री रजनीश सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) स्कूल शिक्षा विभाग अंतर्गत शालाओं के उन्नयन के क्या मापदण्ड हैं? विगत सत्र 2015-16 से प्रश्न दिनांक तक सिवनी जिले में कितनी शालाओं का उन्नयन किया गया है? कितनी शालाओं का उन्नयन होना प्रस्तावित है? विधानसभा क्षेत्रवार विवरण देवें। (ख) विधानसभा क्षेत्र केवलारी के अंतर्गत ग्राम कान्हीवाड़ा वि.ख. सिवनी में क्या कन्या हाई स्कूल का उन्नयन करने का प्रस्ताव विभाग के समक्ष विचाराधीन है? यदि हाँ, तो कब तक कन्या हाई स्कूल कान्हीवाड़ा का उन्नयन किया जावेगा? (ग) यदि नहीं, तो क्यों? जबकि कान्हीवाड़ा कन्या हाई स्कूल में छात्राओं की दर्ज संख्या 400 से अधिक है साथ ही इसमें 5 ग्रामों की छात्राएं अध्ययन करने आती हैं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) प्राथमिक से माध्यमिक के मापदण्ड पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। माध्यमिक से हाई स्कूल एवं हाई स्कूल से हायर सेकेण्डरी के मापदण्ड पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। वर्ष 2015-16 से प्रश्न दिनांक तक सिवनी जिले में कुल 23 हाई स्कूल एवं 1 उ.मा.वि. का उन्नयन किया गया। वर्ष 2016-17 में उन्नयन की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। (ख) एवं (ग) जी हाँ। शासकीय उ.मा.वि. कान्हीवाड़ा की दूरी 0.5 किमी होने से मापदण्ड पूरे न होने के कारण पात्र नहीं हैं। कन्या शाला हेतु पृथक से मापदण्ड निर्धारित नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बाबई में पदस्थ चिकित्सक
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
25. ( *क्र. 1931 ) श्री विजयपाल सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सोहागपुर विधान सभा क्षेत्र के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बाबई में कुल कितने चिकित्सक पदस्थ हैं? इनके नाम पदनाम सहित बतायें। (ख) क्या सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बाबई में डॉ. श्रीमती शोभना चौकसे भट्ट पदस्थ हैं, इनके विरूद्ध विभाग में वर्ष 2008 से अभी तक कितनी शिकायतें प्राप्त हुईं और उन पर क्या-क्या कार्यवाही की गई है और यदि नहीं, की गई तो क्यों? (ग) क्या पिछले वर्षों में इनका स्थानांतरण बाबई से अन्यत्र हुआ है, परंतु इनके द्वारा बार-बार न्यायालय से स्टे ले लिया जाता है? किस कारण से इन्हें बार-बार न्यायालय से स्टे मिलता है? उसके संबंध में भी जानकारी उपलब्ध करावें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बाबई में वर्तमान में कुल 03 नियमित एवं एक संविदा चिकित्सक पदस्थ हैं :- (1) डॉ. संदीप सक्सेना (2) डॉ. राजेश धाकड़ (3) डॉ. आर.एस. मीणा एवं संविदा चिकित्सक डॉ. रमेश कुमार, संविदा। (ख) जी नहीं, वर्तमान में नहीं हैं। शेष जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। जी हाँ। स्टे एक न्यायालयीन प्रक्रिया है। संचालनालय के आदेश क्रमांक 1591, दिनांक 02.02.2017 के द्वारा डॉ. शोभना चौकसे, चिकित्सा अधिकारी का स्थानांतरण सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, सिवनी मालवा किया जा चुका है एवं मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी के पत्र क्रमांक 277 दिनांक 03.02.2017 के द्वारा इन्हें कार्यमुक्त कर दिया गया है।
भाग-2
नियम
46 (2) के
अंतर्गत
अतारांकित
प्रश्नोत्तर
के रुप में
परिवर्तित
तारांकित
प्रश्नोत्तर
खाद्य
और औषधि
निरीक्षक की
पद पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
1. ( क्र. 32 ) श्री हितेन्द्र सिंह ध्यान सिंह सोलंकी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) खाद्य और औषधि विभाग के अंतर्गत इंदौर संभाग में कितने निरीक्षक कब से कार्यरत है कितने पद रिक्त हैं, निरीक्षकों की पदस्थापना दिनांक सहित वर्तमान दिनांक में कहाँ पदस्थ हैं, की जानकारी भी दी जावें। (ख) इंदौर संभाग में विगत 1 वर्ष में निरीक्षकों ने कितने खाद्य,पेय आदि के सेम्पल लिए, कितने सेम्पल कहाँ जाँच हेतु भेजे गए, कितने सेम्पल जाँच में अवमानक पाए गए, सेम्पल भेजने की तिथि और जाँच की तिथि और रिपोर्ट आने की तिथि सहित जानकारी दी जाये। जो सेम्पल अवमानक पाए गए उन फर्मों पर शासन द्वारा क्या कार्यवाही की गई। (ग) प्रश्नांश (क) के अनुसार ऐसे निरीक्षकों को जिन्हें 3 वर्ष से अधिक हो गए क्या उन पर शासन की स्थानान्तर नीति लागू नहीं होती है, यदि नहीं, तो तद्नुसार क्या कार्यवाही की जावेगी और कब तक?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-‘अ’ अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-‘ब’ अनुसार है। (ग) जी नहीं, स्थानांतरण नीति में अधिकतम 20 प्रतिशत स्थानान्तरण के निर्देश होने से 3 वर्ष से अधिक अवधि के खाद्य सुरक्षा अधिकारी एक ही जिले में पदस्थ है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्कूल भूमियों पर अतिक्रमण
[स्कूल शिक्षा]
2. ( क्र. 73 ) श्री जितेन्द्र गेहलोत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रतलाम जिले में शासकीय प्राथमिक, माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों के खाली पड़े भूखण्डों पर, मैदानों पर कहाँ-कहाँ किस-किस ने अतिक्रमण किया है? तहसीलवार ब्यौरा दें. (ख) शासन ने अतिक्रमण कब चिन्हित किये व अतिक्रमणकर्त्ताओं के विरूद्ध कब-कब, क्या-क्या कार्यवाही की? (ग) क्या शाला भूमियों को अतिक्रमण मुक्त करने के लिए प्रशासन सख्त कदम उठाएगा? यदि हाँ, तो किस प्रकार?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों से संबंधित जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। हाई व हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी एकत्रित की जा रही है। (ख) व (ग) अतिक्रमण के चिन्हांकन के दिनांक के संबंध में जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट में अनुसार है। इस संबंध में कलेक्टर, जिला रतलाम द्वारा पत्र क्र. 209 दिनांक 23/1/17 से समस्त राजस्व अधिकारियों को शाला भूमि का सीमांकन एवं नामांतरण हेतु लिखा गया है। हाई व हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी एकत्रित की जा रही है।
उप स्वास्थ्य केन्द्र का निर्माण
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
3. ( क्र. 76 ) श्री जितेन्द्र गेहलोत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) आलोट जिला रतलाम के खारवांकलां उपस्वास्थ्य केन्द्र के निर्माण आदेश एवं कार्य पूर्ण होने की दिनांक का ब्यौरा क्या है? (ख) उक्त उपस्वास्थ्य केन्द्र का निर्माण पूर्ण हो जाने के पश्चात् भी उसे अब तक किस कारण से प्रारंभ नहीं किया गया है? कौन अधिकारी इसके लिये जिम्मेदार है? उन पर क्या कार्यवाही की गई? (ग) जनहित में कब तक उक्त उपस्वास्थ्य केन्द्र प्रारंभ कर दिया जायेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) आलोट जिला रतलाम के खारवांकलां में उप स्वास्थ्य केन्द्र का निर्माण नहीं किया गया है बल्कि सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र का निर्माण किया गया है उक्त सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के निर्माण कार्य का आदेश दिनांक 03.04.2012 को जारी हुआ एवं कार्य पूर्ण करने की निर्धारित तिथि 17 माह अर्थात 03.09.2013 थी। उक्त भवन का कार्य दिनांक 17.06.2016 को पूर्ण हुआ। (ख) उक्त सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र खारवांकलां के निर्माण 17.06.2016 से पूर्ण है परन्तु इसे आधिपत्य में नहीं लिया गया। इस अवधि में भवन में कुछ छोटे-छोटे अतिरिक्त आवश्यक कार्य की स्थिति निर्मित हुई। जिन्हे शीघ्र करवाकर भवन को हस्तांतारित किया जावेगा। अतः शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) यथा-शीघ्र।
शाला भवनों का निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
4. ( क्र. 111 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या पनागर विधान सभा क्षेत्रान्तर्गत गाजर, तिलगवां, निरंदपुर, सुहागी, सकरी, खैरी, देवरीखुर्द, सालीवाड़ा, डूंडी, पड़वार, बम्हनी, बड़खेरा, सकरी, नुनिया, जैतपुरी, उर्दुवाकला आदि स्कूलों के भवन जीर्णशीर्ण स्थिति में हैं? (ख) प्रश्नांश (क) अंतर्गत ऐसे समस्त स्कूल भवनों की सूची देवें एवं अतिरिक्त आधे अधूरे निर्मित किये गये स्कूल भवनों की जानकारी भी देवें जो बजट के अभाव में पिछले पाँच वर्षों से आधे अधूरे पड़े हैं? (ग) क्या शासन द्वारा ऐसे स्कूलों के पुनरूद्धार एवं निर्माण हेतु बजट का प्रावधान किया गया हैं? (घ) यदि हाँ, तो विधानसभा क्षेत्र पनागर के किन किन स्कूलों के लिये बजट स्वीकृत किया गया हैं? सूची देवें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) विधान सभा क्षेत्र पनागर अन्तर्गत संचालित एवं प्रश्नांकित शासकीय हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल के भवन जीर्ण-शीर्ण/जर्जर नहीं है। पनागर विधान सभा क्षेत्रांर्गत प्रश्नांश ''क'' में उल्लेखित प्राथमिक व माध्यमिक शालाओं गाजर, तिलगांव, निरन्दपुर, सुहागी, सकरी, खैरी, देवरीखुर्द, सालीवाडा, डूंडी, पडवार, बम्हानी, बडखेडा, सकरी, नुनिया, जैतपुरी, उर्दुवाकला आदि स्कूलों के भवनों में से मात्र शासकीय प्राथमिक शाला देवरी खुर्द का भवन जीर्ण-शीर्ण स्थिति में हैं। (ख) प्रश्नांश के अन्तर्गत ऐसे कोई स्कूल भवन नहीं है, जो बजट के अभाव में विगत पाँच वर्षों से अधूरी पड़े है। उपरोक्त के अतिरिक्त ऐसे स्कूल भवन एवं अतिरिक्त कक्ष के 24 निर्माण कार्य जो एजेंसी की उदानसीनता एवं एजेन्सी द्वारा अनियमित आहरण कर लिये जाने के कारण अधूरे पड़े है की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। (ग) जी हाँ (घ) विधानसभा क्षेत्र पनागर के एकमात्र शासकीय प्राथमिक शाला देवरीखुर्द के जीर्ण-शीर्ण भवन हेतु वर्ष 2016-17 में नवीन शाला भवन लागत राशि रूपये में 14.66 लाख का बजट स्वीकृत किया गया है तथा इसके अतिरिक्त ऐसे स्कूल भवन एवं अतिरिक्त कक्ष के 24 निर्माण कार्य जो एजेन्सी की उदासीनता एवं एजेन्सी अनियमित आहरण कर लिये जाने के कारण अधूरे पड़े है हेतु स्वीकृत बजट की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है।
राज्य बीमारी सहायता राशि हेतु आवंटित बजट
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
5. ( क्र. 112 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या गरीबी कार्ड धारक व्यक्तियों के लिये राज्य बीमारी सहायता योजना अंतर्गत नि:शुल्क उपचार किया जाता हैं? (ख) यदि हाँ, तो जबलपुर जिले में चालू वित्तीय वर्ष 2016-17 में कितने मरीजों के प्रकरण स्वीकृत किये गये एवं कितनी राशि व्यय की गई? अस्पतालवार विवरण देवें? (ग) क्या आवश्यक आवंटन के अभाव में कई मरीजों का उपचार नहीं किया गया हैं? ऐसा क्यों हुआ? (घ) प्रश्नाधीन अवधि में (2016-17) में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जबलपुर द्वारा कितनी राशि की मांग की गई, कितनी प्राप्त हुई, कितनी लंबित हैं? लंबित राशि का भुगतान कब तक किया जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जबलपुर जिले में वित्तीय वर्ष 2016-17 में 475 प्रकरण स्वीकृत किये गये एवं राशि रूपयें 56601042/- स्वीकृत की गई। शेष भाग की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी नहीं। बजट राशि आवंटन के अभाव में किसी भी मरीज का उपचार नहीं रोका गया है एवं प्रकरणों की स्वीकृति प्रदाय कर उन्हें योजना अन्तर्गत लाभ दिया गया है। (घ) प्रश्नाधीन अवधि (2016-17) में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, जिला जबलपुर द्वारा बजट मांग, प्राप्त राशि एवं लंबित राशि की जानकारी निम्नानुसार हैं :-
क्रं. |
बजट की मांग |
प्राप्त राशि |
लंबित राशि |
1 |
22000000.00 (माह अप्रैल 2016 में) |
12287500.00 |
9712500.00 |
2 |
20000000.00 (माह जुलाई 2016 में) |
14700000.00 |
5300000.00 |
3 |
15000000.00 (माह सितम्बर 2016 में) |
10000000.00 |
5000000.00 |
4 |
20000000.00 (माह जनवरी 2017 में) |
15000000.00 |
3885242.00 |
कुल |
77000000.00 |
51987500.00 |
23897742.00 |
राशि प्राप्त होने पर स्वीकृत किये गये प्रकरणों के लंबित राशि का भुगतान कर दिया जावेगा।
निजी स्कूलों को मान्यता
[स्कूल शिक्षा]
6. ( क्र. 127 ) श्री हितेन्द्र सिंह ध्यान सिंह सोलंकी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बडवाहा विधानसभा क्षेत्र में कितने मान्यता प्राप्त प्राथमिक माध्यमिक प्ले स्कूल हैं, उनके मालिक, व्यवस्थापक यदि ट्रस्ट का नाम हो तो ट्रस्ट का नाम सहित उसकी ग्रामवार शहरवार जानकारी दी जाये। शासन द्वारा किन किन शर्तों एवं नियमों के तहत मान्यता दी है? उसके नियम की कापी देवें। (ख) प्रश्नांश (क) के अनुसार इन प्राथमिक/माध्यमिक/प्ले स्कूल को शासन द्वारा कब मान्यता दी गई? क्या वे शर्तों को पूरी कर रहे हैं? शर्तें पूरी न करने पर विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की जावेगी? (ग) ऐसे कितने स्कूल हैं जो शर्तें पूरी न करते हुए भी संचालन कर रहे हैं? इनके खिलाफ क्या कार्यवाही कब तक की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) मान्यता प्राप्त प्राथमिक, माध्यमिक स्कूलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। पृथक से प्ले स्कूल को मान्यता देने संबंधी प्रावधान नहीं है। मान्यता नियमों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। (ख) प्रश्नांश 'क' के उत्तर के संदर्भ में जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- अ अनुसार है। जी हाँ। अत: शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है। (ग) प्रश्नांश (ख) के उत्तर के प्रकाश में जानकारी निरंक है। अत: शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है।
शासकीय कन्या हायर सेकेण्डरी विद्यालय का संचालन
[स्कूल शिक्षा]
7. ( क्र. 199 ) श्री नारायण सिंह कुशवाह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र ग्वालियर दक्षिण में शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय गोरखी, शासकीय कन्या हायर सेकेण्डरी विद्यालय गजराराजा एवं शासकीय उ.माध्यमिक विद्यालय पदमा कम्पू लश्कर के केम्पस में कितने-कितने विद्यालय संचालित हैं? (ख) इन विद्यालयों की बिल्डिंग कितनी पुरानी है? क्या इन विद्यालयों की बिल्डिंग क्षतिग्रस्त हो गई है? (ग) क्या शासन/प्रशासन द्वारा उपरोक्त विद्यालयों की बिल्डिंगों के जीर्णोद्धार/नवीन निर्माण हेतु कोई योजना है? यदि हाँ, तो कब तक कार्य प्रारंभ कर दिया जावेगा? यदि नहीं, तो कारण बतावें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय गोरखी, शासकीय कन्या हायर सेकेण्डरी विद्यालय गजराराजा एवं शासकीय उ.माध्यमिक विद्यालय पदमा की बिल्डिंग लगभग 100 वर्ष पुरानी है। उक्त विद्यालयों की बिल्डिंग का कुछ हिस्सा क्षतिग्रस्त हो गया है। (ग) उपरोक्त भवनों का जीर्णोद्धार पुर्ननिर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा।
सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत प्रतिनियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
8. ( क्र. 232 ) श्री अमर सिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत बी.ए.सी./बी.जी.सी./सी.ए.सी. के पद पर अध्यापक को प्रतिनियुक्ति पर लिये जाने के शासन के कोई निर्देश हैं? यदि हाँ, तो कितने समय के लिये प्रतिनियुक्ति पर लिये जाने के निर्देश हैं? (ख) राजगढ़ जिले में सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत किन-किन अध्यापकों को बी.ए.सी./बी.जी.सी./सी.ए.सी. के पदों पर कब से प्रतिनियुक्ति पर लिया गया है? उनके प्रतिनियुक्ति आदेश की प्रति उपलब्ध करावें। (ग) क्या आयुक्त, राज्य शिक्षा केन्द्र भोपाल के पत्र क्रमांक राशि के/नियु./2015/7812 भोपाल दिनांक 31.10.2015 द्वारा प्रदेश के जिलों में विकासखण्ड अकादमिक समन्वयक एवं जनशिक्षक के पद पर जिनकी प्रतिनियुक्ति अवधि 4 वर्ष पूर्ण हो चुकी है, के स्थान पर नवीन पदस्थापना संबंधी आदेश जारी किये गये थे? यदि हाँ, तो क्या राजगढ़ जिले में इसका पालन किया गया है? यदि नहीं, तो इसका क्या कारण है? (घ) जिनकी प्रतिनियुक्ति अवधि 4 वर्ष पूर्ण हो गई है उन्हें उनके मूल विभाग में नहीं भेजे जाने के लिये कौन अधिकारी दोषी हैं। दोषी अधिकारी/कर्मचारी के विरूद्ध क्या कार्यवाही की जावेगी? क्या शासन जिनकी प्रतिनियुक्ति अवधि 4 वर्ष पूर्ण हो गई है उन्हें उनके मूल विभाग में भेजेगा? यदि हाँ, तो कब तक और नहीं तो क्यों नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) विभाग के पत्र क्रमांक/एफ 1-45/2010/20-1 दिनांक 26.12.2011 द्वारा अध्यापक संवर्ग के लिए प्रतिनियुक्ति की शर्तें निर्धारित की गई है। जारी शर्त की कण्डिका 3 अनुसार प्रतिनियुक्ति प्रारंभ में 2 वर्ष के लिए है जिसे कार्य व्यवहार की गुणवत्ता के सम्पादन के आधार पर आगामी 2 वर्ष के लिए प्रतिनियुक्ति पर लेने वाले अधिकारी द्वारा बढ़ाया जा सकता है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘1‘‘ अनुसार है। (ग) जी हाँ। राजगढ़ जिले में राज्य शिक्षा केन्द्र के आदेश एवं माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ इंदौर में दायर याचिका डब्ल्यू.पी. क्रमांक 583/2016 में दिनांक 22.1.2016 एवं दिनांक 4.3.2016 में पारित अंतरिम आदेश के अनुपालन में कुल 101 पद (09 बी.ए.सी. एवं 92 जनशिक्षक) के लिए दिनांक 13.3.2016 को काउंसलिंग की गई, जिसमें 145 अभ्यर्थी सम्मिलित हुए। काउंसलिंग पश्चात् कुल 80 अभ्यर्थियों का चयन किया गया। उक्त चयनित अभ्यर्थियों में से 04 वर्ष पूर्ण करने वाले बी.ए.सी. एवं जनशिक्षक के संबंध में तत्समय माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ इंदौर में प्रकरण विचाराधीन होने से मात्र 17 पदों पर अध्यापक संवर्ग की सेवायें प्रतिनियुक्ति पर ली गई है,जो जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘2‘‘ अनुसार है। (घ) माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ इंदौर द्वारा डब्ल्यू.पी. क्रमांक 583/2016 में दिनांक 15.11.2016 को अंतिम आदेश पारित किया गया। पारित आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ’’3’’ अनुसार है। अतः इस हेतु कोई अधिकारी/कर्मचारी दोषी न होने से शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विकेन्द्रीकरण आदेश के विरूद्ध केन्द्रीकरण करने वाला आदेश की निरस्ती
[स्कूल शिक्षा]
9. ( क्र. 241 ) श्री निशंक कुमार जैन : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2016-17 में विदिशा जिले के किन-किन विद्यालयों की अनुमति मान्यता किस-किस कारण कलेक्टर द्वारा अमान्य की गई थी? उक्त विद्यालयों में से किस-किस विद्यालयों द्वारा अपील किस-किस आधार पर आयुक्त लोक शिक्षण को किस दिनांक को प्रस्तुत की गई, कितने विद्यालयों की अपील स्वीकार कर मान्यता जारी की गई कितनों की नहीं? क्या अपील प्रकरणों की आक्षेप पूर्ति संचालनालय स्तर से कराकर अनुमति जारी की गई है? प्रकरणवार सूची सहित कलेक्टर एवं आयुक्त द्वारा पारित आदेश की प्रति उपलब्ध करावें? (ख) क्या म.प्र. राजपत्र (असाधारण) दिनांक 11.02.2015 स्कूल शिक्षा विभाग भोपाल के द्वारा म.प्र. शासकीय माध्यमिक एवं उ.मा.वि. शालाओं की अनुमति, मान्यता एवं मान्यता वृद्धि का विकेन्द्रीकरण कर जिला स्तर पर नवीन मान्यता के लिये जिला कलेक्टर एवं मान्यता वृद्धि के लिये जिला शिक्षा अधिकारी को समक्ष अधिकारी बनाये जाने का निर्णय लिया है? (ग) क्या उक्त विक्रेन्द्रीकरण आदेश के विरूद्ध केन्द्रीकरण करने के आदेश आयुक्त लोक शिक्षण म.प्र. द्वारा दिनांक 08.11.2016 को जारी किया है? यदि हाँ, तो इसके लिये कौन अधिकारी एवं कर्मचारी दोषी है? (घ) प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित राजपत्र के क्रम में प्रश्नकर्ता द्वारा पत्र क्रमांक/4912, दिनांक 28.11.2016 प्रमुख सचिव, स्कूल शिक्षा विभाग एवं आयुक्त लोक शिक्षण को पत्र लिख कर उक्त केन्द्रीकरण आदेश को निरस्त करने की मांग की गई थी या नहीं? यदि हाँ, तो उक्त पत्र के क्रम में अभी तक किस-किस स्तर पर क्या कार्यवाही हुई, प्रश्नकर्ता को अवगत कराया गया है या नहीं? यदि नहीं, तो इसके लिये कौन दोषी हैं? केन्द्रीकरण करने संबंधी आदेश कब तक निरस्त किया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) विदिशा जिले में जिला कलेक्टर द्वारा संस्थाओं की मान्यता संबंधी प्रकरण अमान्य किये जाने के उपरांत 27 संस्थाओं द्वारा ऑनलाईन अपील आयुक्त लोक शिक्षण को की गई। उक्त प्राप्त अपीलों पर संचालनालय में सुनवाई उपरांत 22 संस्थाओं की अपील स्वीकार करते हुए मान्यता जारी की गई। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार। 5 संस्थाओं की अपील अमान्य की गई जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार। कलेक्टर द्वारा अमान्य करने का कारण एवं आयुक्त लोक शिक्षण को अपील प्रस्तुत करने का दिनांक पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘1’ एवं 2 में निहित है। पारित आदेशों की प्रतियाँ पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘3’’ अनुसार हैं। (ख) जी हाँ। (ग) सक्षम प्राधिकारी के निर्णय की स्वीकृति के अनुक्रम में आदेश दिनांक 8.11.2016 जारी किया गया है। इसके लिये कोई भी अधिकारी/कर्मचारी दोषी नहीं है। (घ) जी हाँ। पत्र परीक्षणाधीन है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
राज्य बीमारी सहायता निधि के प्रकरण
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
10. ( क्र. 408 ) श्री रामलाल रौतेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला चिकित्सालय अनूपपुर के माध्यम से राज्य बीमारी सहायता निधि योजनांतर्गत वित्तीय वर्ष 2014-15 से 2016-17 तक जिला अनूपपुर से बाहर निजी चिकित्सालयों में इलाज हेतु कितने प्रकरण भेजे गये? रोगी का नाम, पिता का नाम, पूर्ण पता, रोग का प्रकार इलाज हेतु स्वीकृत राशि, इलाज करने का दिनांक एवं वर्ष, जिस चिकित्सालय में इलाज हुआ, उसका पूर्ण पता बतायें? (ख) म.प्र. शासन द्वारा प्रश्नांकित योजनान्तर्गत प्रकरण बनाने हेतु क्या नियम व निर्देश हैं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जिला चिकित्सालय अनूपपुर से 333 प्रकरण राज्य बीमारी सहायता निधि योजनांतर्गत वित्तीय वर्ष 2014-15 से 2016-17 तक निजी चिकित्सालयों में इलाज हेतु भेजे गये। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-“अ” अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-“ब” अनुसार है।
प्रधानाध्यापक माध्यमिक शाला को तृतीय कर्मचारी होने का उल्लेख
[स्कूल शिक्षा]
11. ( क्र. 423 ) श्री महेन्द्र सिंह कालूखेड़ा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रधानाध्यापक माध्यमिक शाला को कर्मचारी बीमा बचत योजना 2003 के अंतर्गत विभाग से जारी परिपत्र दिनांक 08.09.2016 में प्रधानाध्यापक माध्यमिक शाला को तृतीय कर्मचारी होने का उल्लेख है क्या? (ख) उक्त विभागीय आदेश त्रुटिपूर्ण मानते हुए आयुक्त, लोक शिक्षण म.प्र. द्वारा उक्त आदेश स्थगित क्यों किया गया? उक्त आदेश त्रुटिपूर्ण होने पर निरस्त न किये जाने का क्या कारण है? (ग) म.प्र. राजपत्र 2016 में जारी नियमों में उक्त विसंगति उत्पन्न करने के लिये कौन दोषी है और दोषी के विरूद्ध क्या कार्यवाही शासन द्वारा की गई है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। प्रकरण परीक्षणाधीन है। (ग) म.प्र. राजपत्र दिनांक 21 मार्च 2007 की अनुसूची 1 में स.क्र. 15 पर प्रधानाध्यापक माध्यमिक शाला का पद द्वितिय श्रेणी में शामिल होने के आधार पर म.प्र. राजपत्र दिनांक 12 जुलाई 2016 में भी शामिल किया गया है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
गोविंदपुरा विधान सभा क्षेत्र में अस्पताल की स्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
12. ( क्र. 438 ) श्री बाबूलाल गौर : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) गोविन्दपुरा विधान सभा क्षेत्र में सर्व सुविधायुक्त 100 बिस्तरों के अस्पताल निर्माण की योजना बनाई गई है? (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में प्रश्नकर्ता द्वारा विभागीय मंत्री को लिखे पत्र क्रमांक 375 दिनांक 20.12.2016 पर क्या कार्यवाही की गई? (ग) अस्पताल निर्माण की योजना कब प्रारंभ की जायेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी नहीं। (ख) पत्र के संबंध में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, भोपाल से आवश्यक प्रस्ताव व अभिमत टीप मांगी गई है। जानकारी प्राप्त होने पर आवश्यक कार्यवाही की जावेगी। (ग) विषयांतर्गत में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी भोपाल से प्रस्ताव टीप प्राप्त होने पर नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी।
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र अस्पताल प्रारंभ करना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
13. ( क्र. 459 ) इन्जी. प्रदीप लारिया : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नगर पालिका मकरोनिया बुजुर्ग में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र 30 बिस्तरीय अस्पताल की स्वीकृति कब प्रदान कर दी गई है? (ख) क्या स्वीकृति उपरांत सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र 30 बिस्तरीय अस्पताल खोलने हेतु शासन स्तर पर क्या कार्यवाही की गई है? (ग) क्या स्वीकृत सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र 30 बिस्तरीय अस्पताल को किराये के भवन में स्टॉफ सहित शुरू किये जाने का प्रावधान है? यदि हाँ, तो उक्त 30 बिस्तरीय अस्पताल कब तक प्रारंभ किया जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन म.प्र. के आदेश क्रमांक/एन.एच.एम./शहरी स्वास्थ्य/2016/10337 द्वारा दिनांक 17.10.2016 द्वारा शहरी सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र खोलने की स्वीकृति की गई है। (ख) परियोजना परीक्षण समिति के अनुमोदन हेतु प्रकरण विचाराधीन है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
कोलारस विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत संचालित हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूल
[स्कूल शिक्षा]
14. ( क्र. 490 ) श्री रामसिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कोलारस विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत दिसम्बर 2016 की स्थिति में हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल (10+2) कहाँ-कहाँ पर संचालित हैं तथा इनमें कितने-कितने विद्यार्थी अध्ययनरत् हैं तथा कितने-कितने शिक्षक इन स्कूलों में पदस्थ हैं? छात्र संख्या के मान के अनुसार शिक्षकों की कहाँ-कहाँ कमी है? इनकी पूर्ति कब तक की जावेगी? (ख) उक्त स्कूलों में से कौन-कौन से स्कूल भवनविहीन हैं? भवनविहीन स्कूलों में स्कूल भवन का निर्माण कब तक किया जावेगा? (ग) कोलारस विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत शैक्षणिक सत्र 2017-18 में नवीन हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी कहाँ-कहाँ पर प्रारंभ किया जाना है? इसकी स्वीकृति पत्र की छायाप्रति संलग्न कर जानकारी दें? (घ) क्या बदरवास विकासखण्ड के ग्राम खतौरा में शैक्षणिक सत्र 2017-18 में नवीन हायर सेकेण्डरी स्कूल (10+2) खोले जाने की घोषणा विधानसभा में वर्ष 2016 में की है? यदि हाँ, तो स्वीकृति पत्र की प्रति संलग्न कर जानकारी दें? यदि स्वीकृति पत्र जारी नहीं हुआ है, तो कब तक जारी कर दिया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- एक अनुसार है। पद पूर्ति एक सतत् प्रक्रिया है। रिक्त पदों के विरूद्ध अतिथि शिक्षकों से अध्यापन कार्य कराया जा रहा है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार है। भवन निर्माण की स्वीकृति बजट उपलब्धता पर निर्भर करेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) एवं (घ) स्कूलों के उन्नयन हेतु नियमानुसार विभागीय कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नवीन हाईस्कूल खोलने की स्वीकृति
[स्कूल शिक्षा]
15. ( क्र. 493 ) श्री रामसिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शिवपुरी जिले के कोलारस विकासखण्ड के ग्राम मकरारा में नवीन हाईस्कूल खोलने हेतु जिला शिक्षा अधिकारी शिवपुरी ने उनके पत्र क्रमांक 734, दिनांक 03.03.2016 से प्रस्ताव आयुक्त लोक शिक्षण मध्यप्रदेश भोपाल को भेजा है? यदि हाँ, तो उक्त प्रस्ताव पर स्वीकृति कब तक प्रदान कर दी जावेगी? (ख) क्या माननीय उच्च न्यायालय के सेवानिवृत्त माननीय जज श्री एन.के. जैन द्वारा स्वयं के व्यय पर ग्राम मकरारा में 12 लाख की लागत से नवनिर्मित स्कूल भवन तत्कालीन माननीय स्कूल शिक्षा मंत्री श्री पारस जैन की उपस्थिति में दिनांक 28.11.2015 को विभाग को समर्पित कर दिया है? यदि हाँ, तो नवीन हाईस्कूल की स्वीकृति में विलंब क्यों हो रहा है? (ग) क्या तत्कालीन माननीय स्कूल शिक्षा मंत्री श्री पारस जैन द्वारा दिनांक 28.11.2015 को ग्राम मकरारा में आयोजित कार्यक्रम में मकरारा में नवीन हाईस्कूल खोले जाने की घोषणा की थी? यदि हाँ, तो उक्त घोषणा पर आज दिनांक क्या-क्या कार्यवाही की गई? घोषणा के क्रम में नवीन हाईस्कूल क्यों प्रारंभ नहीं किया गया? (घ) क्या ग्राम मकरारा में शैक्षणिक सत्र 2017-18 से हाईस्कूल की कक्षाएं प्रारंभ हो जाएगी? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। शाला का उन्नयन मापदडों की पूर्ति एवं बजट की उपलब्धता पर निर्भर होता है। समय-सीमा बताना संभव नहीं है। (ख) एवं (ग) जी हाँ। प्रश्नांश 'क' के उत्तरांश अनुसार। (घ) उत्तरांश 'क' एवं 'ख' के उत्तर अनुसार।
बालिकाओं के ड्रॉप आउट के बढ़ रहे प्रतिशत में कमी करायी जाना
[स्कूल शिक्षा]
16. ( क्र. 526 ) श्री सुन्दरलाल तिवारी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रीवा जिला अन्तर्गत कितनी कन्या माध्यमिक शाला एवं कन्या हाई स्कूल तथा कन्या हायर सेकेण्डरी स्कूल संचालित है? शासन द्वारा इनके संचालन बाबत् क्या नीति निर्धारित की है? नीति की प्रति देते हुए बतावें कि क्या शासन की नीतियों के तहत विद्यालयों का संचालन हो रहा है? अगर नहीं तो क्यों? (ख) क्या विद्यालयों की कमी शिक्षकों की समुचित व्यवस्था न किये जाने के साथ बच्चियों की सुरक्षा व्यवस्था में कमी है, जिस कारण बच्चियों के ड्रॉप आउट का प्रतिशत जिले सहित पूरे प्रदेश में बढ़ा है? ड्रॉप आउट का प्रतिशत जिले एवं प्रदेश में क्या है? इसमें कमी बाबत् शासन एवं प्रशासन द्वारा क्या कार्यवाही की जा रही है? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार रीवा जिले अंतर्गत बच्चियों के ड्रॉप आउट में कमी एवं अन्य पठन-पाठन की सुविधा हेतु शासन द्वारा वर्ष 2014 से प्रश्नांश दिनांक तक में कितनी-कितनी राशि दी गई एवं इसका उपयोग कब-कब, कहाँ-कहाँ किया गया? (घ) प्रश्नांश (ख) अनुसार राज्य सरकार द्वारा कन्याओं/बालिकाओं के पठन-पाठन हेतु विद्यालयों की समुचित व्यवस्था एवं संचालन की कमी के साथ सुरक्षा के कारण ड्रॉप आउट बढ़ा है, नवीन विद्यालयों के संचालन बाबत् शासन एवं प्रशासन द्वारा कब तक कार्यवाही की जावेगी, जिससे लड़कियों के ड्रॉप आउट में कमी हो?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) रीवा जिलान्तर्गत 26 कन्या माध्यमिक शाला, 09 कन्या हाईस्कूल, 16 कन्या हा.से. स्कूल संचालित है। कन्या शाला के संचालन हेतु पृथक से कोई नीति नहीं है। शासन की नीतियों के तहत विद्यालयों का संचालन किया जा रहा है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) यह कहना गलत है कि बालिकाओं के ड्रॉप आउट का प्रतिशत बढ़ रहा है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र -2 अनुसार है। (घ) उत्तरांश (ख) के प्रकाश में शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
शासकीय अस्पतालों में दवाई एवं डायलिसिस की नि:शुल्क सुविधा मुहैया कराना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
17. ( क्र. 527 ) श्री सुन्दरलाल तिवारी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रीवा संभाग अंतर्गत संचालित शासकीय अस्पतालों में से किन-किन अस्पतालों में राज्य शासन द्वारा किडनी की बीमारी के मरीजों को डायलिसिस की सुविधा उपलब्ध करायी गई है तथा अनुमानत: कितने मरीजों का डायलिसिस प्रतिदिन किया जा रहा है? (ख) प्रश्नांश (क) अन्तर्गत शासन द्वारा कितनी-कितनी राशि संबंधित अस्पतालों को मरीजों के डायलिसिस एवं दवाई बाबत् वर्ष 2012 से प्रश्न दिनांक तक में उपलब्ध करायी गई, वर्षवार एवं अस्पतालवार विवरण देवें? अगर नहीं दी गई तो क्यों? (ग) मरीजों की डायलिसिस हेतु शासन द्वारा कितना शुल्क निर्धारित किया गया है? क्या बी.पी.एल.एवं गैर बी.पी.एल. परिवार की सुविधा एवं शुल्क में अंतर है? अगर है तो इस गंभीर बीमारी हेतु क्या एक रूपता मरीजों के उपचार हेतु लागू कर सभी मरीजों को दवाई की सुविधा मुहैया करायेंगे? अगर नहीं तो क्यों? (घ) प्रश्नांश (क) अनुसार मरीज के एक बार डायलिसिस कराने में कितना खर्च होता है? सामान्य एवं गरीब परिवार जिसका नाम बी.पी.एल. सूची में नहीं है दवा कराने में सक्षम नहीं है, इस बाबत् शासन क्या उचित निर्णय लेकर बगैर बी.पी.एल. धारियों को भी डायलिसिस सहित दवाई नि:शुल्क उपलब्ध कराने का प्रावधान निहित कर समानता लायेंगे? यदि हाँ, तो कब तक?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। प्रतिदिन प्रति मशीन 02 मरीजों को डायलिसिस की व्यवस्था है। (ख) वर्ष 2016-17 में डायलिसिस मरीजों की जाँच एवं दवाइयों हेतु आवंटित राशि की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। राज्य शासन द्वारा अस्पतालों को मरीजों के डायलिसिस एवं दवाई हेतु वर्ष 2012 से 2015-16 तक योजना संचालित न होने के कारण पृथक से कोई राशि आवंटित नहीं की गई थी। (ग) बी.पी.एल. रोगियों को निःशुल्क डायलिसिस सुविधा उपलब्ध कराई जाती है एवं अन्य रोगियों हेतु प्रति सत्र राशि रूपये 500 का शुल्क निर्धारित है। जी नहीं, बी.पी.एल. एवं गैर बी.पी.एल. की सुविधा में कोई अन्तर नहीं है, सभी श्रेणियों के मरीजों को शासकीय चिकित्सालयों में दवाइयां निःशुल्क उपलब्ध कराई जाती है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) बी.पी.एल. मरीजों के लिए डायलिसिस सुविधा पूर्णतः निःशुल्क है एवं ए.पी.एल. मरीजों को मात्र रूपये 500/- प्रति सत्र शुल्क देना होता है। जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
भवन विहीन हाई स्कूल तथा हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में नवीन भवन निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
18. ( क्र. 546 ) श्री जसवंत सिंह हाड़ा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शुजालपुर विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत भवन विहीन हाई स्कूल तथा हायर सेकेण्डरी स्कूल के लिए नवीन भवनों के निर्माण के संबंध में प्रस्ताव विभाग द्वारा शासन को भेजे गये है? यदि हाँ, तो सूची उपलब्ध करायी जाए। (ख) विभाग द्वारा प्रेषित नवीन भवनों के निर्माण हेतु प्रस्ताव पर स्वीकृति के संबंध में शासन द्वारा क्या कार्यवाही की जा रही हैं? कब तक भवन विहीन स्कूलों के लिए नवीन भवन निर्माण किये जायेंगे। (ग) विधानसभा क्षेत्र शुजालपुर अंतर्गत ऐसे कितने विद्यालय है, जिनमें छात्र संख्या के मान से पर्याप्त छात्रों के बैठने हेतु कक्ष उपलब्ध नहीं हैं? (घ) प्रश्नांश (ग) अंतर्गत उल्लेखित स्कूलों में अतिरिक्त कक्ष निर्माण के संबध में शासन क्या योजना बना रहा है? कब तक स्कूलों में अतिरिक्त कक्ष निर्माण की स्वीकृति प्रदान की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। (ख) शाला भवन का निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (घ) अतिरिक्त कक्ष का निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
जबलपुर में एक्सीलेंस स्पोर्टस स्कूल प्रारंभ करवाना
[स्कूल शिक्षा]
19. ( क्र. 566 ) श्री तरूण भनोत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जबलपुर में संभागीय एक्सीलेंस स्पोर्टस स्कूल प्रारंभ करवाने के लिये स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा एक वर्ष पूर्व जबलपुर संभाग से जमीनों की उपलब्धता की जानकारी चाही थी? यदि हाँ, तो शासन द्वारा भेजे गये पत्र की प्रति दी जावे? क्या उक्त पत्र को जिला शिक्षा अधिकारी एवं संभागीय शिक्षा अधिकारी द्वारा नजर अंदाज कर प्रशासनिक स्तर पर कोई चर्चा नहीं की जिसके फलस्वरूप जबलपुर में स्पोर्ट्स स्कूल प्रारंभ होने की कार्यवाही और भी लंबित होती गई? (ख) यदि वर्णित (क) हां, तो क्या जबलपुर के विकास के लिये एवं स्पोर्टस स्कूल प्रारंभ हेतु जनप्रतिनिधियों को क्यो विश्वास में नहीं लिया गया? इसके लिये दोषी अधिकारियों पर शासन क्या दण्डात्मक कार्यवाही करेगा? (ग) अब कब तक जबलपुर संभाग में एक्सीलेंस स्पोर्टस स्कूल प्रारंभ करवाने के लिये प्रस्ताव पर्याप्त जमीन की उपलब्धता के साथ एवं जनप्रतिनिधियों को विश्वास में लेते हुये शासन को भेज दिया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) एवं (ग) प्रश्नांश 'क' के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
मरीजों को ब्लड देने एवं क्रास मैच के शुल्क की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
20. ( क्र. 576 ) श्री तरूण भनोत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या डायरेक्टर स्टेट ब्लड ट्रान्सफ्यूजन काउंसिल एण्ड पब्लिक हेल्थ एण्ड फैमिली वेलफेयर म.प्र. शासन द्वारा अपने पत्र क्र. 1274/SBTC/2015 भोपाल, दिनांक 9/11/2015 के द्वारा प्रदेश के समस्त शासकीय ब्लड बैंक प्रभारियों, समस्त सी.एम.ओ. अस्पताल अधीक्षकों को चिकित्सालय में भर्ती मरीजों एवं बाहर से आने वाले मरीजों को ब्लड देने एवं क्रास मैच का शुल्क राशि 1050/- कर दिया जाने हेतु निर्देश जारी किये हैं? (ख) क्या पूर्व में प्रदेश के समस्त शास.चिकित्सालयों एवं ब्लड बैंको में ब्लड देने एवं क्रास मैच का शुल्क 250/- रूपये था? क्या राशि अधिक होने से चिकित्सालय में भर्ती गरीब मरीजों एवं बाहर से आने वाले मरीजों को आर्थिक कठिनाइयों का सामना नहीं करना पड़ेगा? (ग) कब तक प्रदेश के समस्त शास.चिकित्सालयों एवं ब्लड बैंकों में पूर्व की भांति ब्लड देने एवं क्रास मैच का शुल्क जनहित हेतु राशि 250/- कर दिया जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (राष्ट्रीय रक्ताधान परिषद् के दिशा-निर्देशों के अनुसार)। (ख) जी नहीं। जी नहीं। गरीबी रेखा से नीचे के परिवारों, सभी राष्ट्रीय कार्यक्रमों के रोगी (शिशु एवं मातृ स्वास्थ्य, क्षय रोग, कैंसर, एड्स आदि) ट्रॉमा व एक्सीडेंट के रोगियों, थैलेसीमिया, हीमोफीलिया, सिकिलसेल एनीमिया के रोगियों एवं अन्य ब्लड डिसक्रेसिया के रोगियों (जिन्हें बार-बार होल ह्यूमन रक्त एवं रक्त कम्पोनेंट की आवश्यकता होती है) को रक्त एवं रक्त कम्पोनेंट निःशुल्क उपलब्ध कराने के निर्देश है। (ग) उपरोक्त उत्तरांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
प्राचार्यों के रिक्त पदों की पूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
21. ( क्र. 598 ) श्रीमती प्रतिभा सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बरगी वि.स. क्षेत्र के किन-किन हाईस्कूलों, हा.से. स्कूलों में प्राचार्य का पद कब से रिक्त है? क्या हाईस्कूल, डगडगा हिनौता, मनकेड़ी, कन्या हा.से. स्कूल बेलखेड़ा में प्राचार्य का पद रिक्त है? उक्त पदों पर नियमित पदस्थापना कब तक की जावेगी? (ख) बरगी वि.स. क्षेत्र के शास. हाईस्कूल/हा.से. स्कूलों में विषयवार स्कूलवार शिक्षकों के कितने-कितने पद रिक्त है? उपरोक्त रिक्त पदों की पूर्ति कब तक की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। शासकीय हाईस्कूल डगडगा हिनोता में प्राचार्य का पद स्वीकृत नहीं है। शासकीय हाई स्कूल मनकेडी एवं शासकीय उ.मा.वि. कन्या बेलखेडी में प्राचार्य का पद रिक्त है रिक्त पदों की पूर्ति पदोन्नति/स्थानांरण आदि से की जाती है जो कि एक सतत् प्रक्रिया है, निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-ब अनुसार है। रिक्त पदों की पूर्ति पदोन्नति/स्थानांतरण आदि से की जाती है। वर्तमान में पदोन्नति पर आरक्षण के संबंध में माननीय सर्वोच्च न्यायालय नई दिल्ली में प्रकरण विचाराधीन है इसलिये पदोन्नति संबंधी कार्यवाही स्थगित होने से भी पर रिक्त है। यह एक सतत् प्रक्रिया है, निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
अनुसूचित जाति बस्ती विकास हेतु ग्रामों का निर्धारण
[अनुसूचित जाति कल्याण]
22. ( क्र. 599 ) श्रीमती प्रतिभा सिंह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा अनुसूचित जाति बस्तियों के विकास हेतु ग्रामों का निर्धारण कब किस आधार पर किया गया? (ख) क्या बरगी वि.स. क्षेत्र की तीन ग्राम पंचायतों की ही अनु.जा. बस्ती विकास कार्यों हेतु निर्धारित किया गया है? यदि हाँ, तो यह अनु. जा. बाहुल्य अन्य ग्रामों/ग्राम पंचायतों के अनुसूचित जाति वर्ग के साथ भेदभाव नहीं होगा? क्या शासन इसकी समीक्षा कर अनु.जा. बाहुल्य सभी ग्रामों के विकास हेतु आवंटन जारी करके निर्देश देगा?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) अनुसूचित जाति बस्तियों के विकास हेतु अनुसूचित जाति की जनसंख्या के आधार पर ग्रामों का निर्धारण आयुक्त, अनुसूचित जाति विकास के पत्र दिनांक 24.03.2015 द्वारा किया गया। (ख) जी हाँ। 03 ग्राम अंडिया, सूखा एवं जमुनिया चयनित हैं। अनुसूचित जाति बाहुल्य ग्रामों का चयन अनुसूचित जाति की जनसंख्या के घटते क्रम में किया गया है। अत: अनुसूचित जाति वर्ग के साथ भेदभाव का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। बस्ती विकास योजना नियम 2014 में 40 प्रतिशत से अधिक अनुसूचित जाति जनसंख्या एवं जहां कम से कम 20 अनुसूचित जाति के परिवार निवासरत हो, ऐसे ग्रामों/बस्तियों/मजरे/टोले/वार्ड/पारे में राशि उपलब्धता के आधार पर कार्य कराने के निर्देश हैं।
हाई स्कूल का नये भवन में संचालन
[स्कूल शिक्षा]
23. ( क्र. 627 ) श्री गिरीश गौतम : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रीवा जिले की विकास खण्ड नईगढ़ी अंतर्गत शासकीय हाई स्कूल कसियार का भवन निर्माण कब पूर्ण हुआ, उसकी लागत क्या है, किस ठेकेदार द्वारा कार्य कराया गया तथा कार्य कराने वाली एजेन्सी कौन है? (ख) क्या अभी भी उक्त नव-निर्मित हाई स्कूल भवन को संचालित नहीं किया गया है और स्कूली बच्चों को पुराने जर्जर भवन में ही बैठना पड़ रहा है? (ग) यदि हाँ, तो किसकी लापरवाही के कारण भवन को स्कूल को नहीं सौंपा गया? उनके विरूद्ध क्या कार्यवाही की जायेगी? कब तक भवन को स्कूल संचालन के लिए सौंप दिया जायेगा।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) रीवा जिले के विकासखण्ड नईगढी अंतर्गत शासकीय हाईस्कूल कसियार नाम का कोई स्कूल नहीं है। अपितु शासकीय हाईस्कूल कसियार गांव है। उक्त हाईस्कूल भवन निर्माण का कार्य 30.09.2014 को पूर्ण हुआ। उक्त विद्यालय के भवन निर्माण की लागत 32.15 लाख है, तथा एजेन्सी पी.आई.यू. है। (ख) उक्त नव निर्मित हाईस्कूल भवन में कक्षाओं का संचालन किया जा रहा है। विद्यालय में कोई भी छात्र-छात्राएं जर्जर भवन में नहीं बैठ रहे है। (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
ब्लैक
लिस्टेड
ठेकेदार
द्वारा जननी
एक्सप्रेस
का संचालन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
24. ( क्र. 628 ) श्री गिरीश गौतम : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रीवा जिले में जननी एक्सप्रेस के संचालन के ठेकेदार तिवारी टूर एण्ड ट्रेवल्स द्वारा की गयी अनियमितताओं के कारण फर्म को ब्लैक लिस्टेड किया गया है? यदि हाँ, तो कब किया गया? आदेश की प्रति उपलब्ध करायें। (ख) क्या ब्लैक लिस्ट होने के बाद भी रीवा जिले में अभी उक्त फर्म द्वारा ही जननी एक्सप्रेस का संचालन किया जा रहा है? (ग) क्या रीवा जिले के स्वास्थ्य अधिकारियों द्वारा संयुक्त संचालक को पत्र लिख कर ब्लैक लिस्ट से बाहर करने का पत्र लिखा गया है? पत्र की प्रतिलिपि उपलब्ध कराये तथा कारण बताएं कि क्यों ब्लैक लिस्ट से बाहर किया जा रहा है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। दिनांक 05/09/2014 को। आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ’’एक’’ अनुसार है। (ख) जी नहीं। (ग) जी हाँ। पत्र की प्रतिलिपि पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ’’दो’’ अनुसार है। याचिका क्रमांक-14024/2014 प्रकरण में दिनांक 17/04/2015 को माननीय उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा स्थगन देने के कारण।
कर्मचारियों की मृत्यु उपरांत परिजनों को अनुकम्पा नियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
25. ( क्र. 644 ) श्री रामनिवास रावत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में शिक्षक एवं अध्यापक संवर्ग के कर्मचारियों की शासकीय सेवा में मृत्यु उपरांत परिजनों को अनुकम्पा नियुक्ति दिए जाने के कितने प्रकरण किस कारण से लंबित हैं? जिलेवार बतावें। (ख) क्या प्रश्नांश (क) के कर्मचारियों की शासकीय सेवा में मृत्यु उपरांत परिजनों को संविदा शिक्षक वर्ग 2 एवं 3 के पद पर अनुकम्पा नियुक्ति हेतु डी.एड./बी.एड. की योग्यता के साथ-साथ शिक्षक पात्रता परीक्षा (टी.ई.टी.) की अनिवार्यता की गई है? (ग) यदि हाँ, तो उक्त शर्त के पश्चात् कब-कब टी.ई.टी. परीक्षा आयोजित की गई? यदि नहीं, तो क्यों? क्या टी.ई.टी. योग्यता की अनिवार्य शर्त के कारण अनुकम्पा नियुक्ति नहीं मिल पा रही है? क्या विभाग द्वारा उक्त शर्त को शिथिल किये जाने हेतु पत्र क्रमांक PS/RTE/2013/191/CPI/2012 BHOPAL DATAED 27 JAN 2015 से मानव संसाधन मंत्रालय, शालेय शिक्षा एवं साक्षरता विभाग, भारत सरकार को लिखा है? यदि हाँ, तो उक्त पत्र के क्रम में क्या मार्गदर्शन प्राप्त हुआ है? (घ) क्या शासन प्रश्नांश (क) अनुसार लंबित प्रकरणों में शिक्षकों की भांति अध्यापक संवर्ग के कर्मचारियों के प्रकरणों में अन्य विभागों में सहायक ग्रेड-3, भृत्य आदि पदों पर अनुकंपा नियुक्ति प्रदान कर प्रकरणों का निराकरण करने की नीति बनाएगा? यदि नहीं, तो अध्यापक संवर्ग के कर्मचारियों के अनुकम्पा नियुक्ति के प्रकरणों का निराकरण किस प्रकार किया जावेगा?
स्कूल
शिक्षा
मंत्री (
कुँवर विजय
शाह ) : (क) प्रश्नांकित
अनुकंपा
नियुक्ति के
लंबित
प्रकरणों का
कारण एवं जिलेवार
सूची संलग्न
परिशिष्ट पर है।
(ख) जी हाँ। (ग) वर्ष
2011-12 में
टी.ई.टी.
परीक्षा
आयोजित की गई
है, जिसकी
वैधता दिनांक 06/08/2014 तक थी।
नियमों में
संशोधन एवं
पदों की स्वीकृति
के पश्चात्
पात्रता
परीक्षा के
आयोजन की
कार्यवाही
पुन: प्रचलन
में है। जी
हाँ। भारत
सरकार से
मार्गदर्शन
प्राप्त
नहीं हुआ है। (घ)
प्रश्नाश 'ग' के
परिप्रेक्ष्य
में प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता।
परिशिष्ट
- ''सात''
मा.शा. पौण्डी कला के प्रधानाध्यापक की जाँच
[स्कूल शिक्षा]
26. ( क्र. 668 ) श्रीमती नंदनी मरावी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के अता. प्रश्न संख्या 77 (क्रमांक 1073), दिनांक 09/12/2016 में अवगत कराया गया था कि सिहोरा विधान सभा क्षेत्रांतर्गत माध्यमिक शाला पौण्डी कला के प्रधानाध्यापक के विरूद्ध प्रश्नकर्ता की शिकायत की जाँच हेतु संयुक्त संचालक लोक शिक्षण जबलपुर को नियुक्त किया गया था। (ख) प्रश्नांश (क) जाँच अधिकारी द्वारा कब प्रतिवेदन प्रस्तुत किया गया। प्रतिवेदन की प्रति उपलब्ध करायें। जाँच के निष्कर्ष क्या रहे। प्रश्नकर्ता द्वारा जाँच अधिकारी को पत्र लिखने के बाद भी प्रश्नकर्ता को प्रश्नांश दिनांक तक अवगत क्यों नहीं कराया गया है। (ग) यदि जाँच अधिकारी द्वारा समय पर जाँच नहीं की गई तो किसी अन्य जिम्मेदारी अधिकारी को जाँच क्यों नहीं सौंपी गई। अभी तक संबंधित को उस शाला से स्थानांतरित क्यों नहीं किया गया। कब तक कर दिया जावेगा।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी एवं जांच प्रतिवेदन की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। जाँच प्रतिवेदन में श्रीमती ठाकुर को प्रथम दृष्ट्या दोषी पाये जाने के फलस्वरूप संचालनालय के आदेश दिनांक 17.02.2017 द्वारा निलंबित किया गया है। संयुक्त संचालक लोक शिक्षण जबलपुर संभाग जबलपुर के पत्र दिनांक 15.02.2017 द्वारा निज सहायक माननीय विधायक विधानसभा क्षेत्र सिहोरा को अवगत कराया गया है। (ग) प्रश्नांश 'ख' के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उत्पन्न नहीं होता।
निर्माण कार्यों में अनियमितताओं की जाँच
[आदिम जाति कल्याण]
27. ( क्र. 708 ) श्री मधु भगत : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) परियोजना सहायक आदिवासी विकास बैहर जिला बालाघाट में वर्ष 2013-14 से प्रश्न दिनांक तक कौन-कौन से कार्य कितनी-कितनी राशि के करवाये गये नियुक्त कार्य एजेंसी के नाम सहित विकासखण्डवार एवं वर्षवार पूर्ण ब्यौरा देवें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार कार्य में से कौन-कौन से कार्य पूर्ण हैं कितने अपूर्ण हैं उक्त कार्य में से किस-किस कार्य के लिये कितनी राशि का भुगतान चेक/ड्राफ्ट/ नगद राशि के रूप में किया गया वर्षवार कार्यवार भुगतान की गई राशि का पूर्ण ब्यौरा देवें। (ग) प्रश्नांश (क) में वर्णित कार्यों में से कौन-कौन से कार्य हैं जिनके पूर्ण किये बिना कार्य से अधिक राशि का भुगतान किया गया? कार्यवार किये गये भुगतान का पूर्ण ब्यौरा देवें। (घ) प्रश्नांश (क) अनुसार स्वीकृत कार्यों में से अनियमितता और भ्रष्टाचार की कितनी शिकायतें जिला एवं राज्य स्तर पर प्राप्त हुई? शिकायतों का विवरण देते हुए बतायें कि इनमें से किन-किन शिकायतों की जाँच किसके द्वारा की गई एवं जाँच पश्चात् क्या कार्यवाही की गई?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) से (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (घ) निरंक। शेष का प्रश्न ही उपस्थित होता।
निर्माण कार्य/ राशि एवं अनियमितता की जाँच
[आदिम जाति कल्याण]
28. ( क्र. 709 ) श्री मधु भगत : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) आदिवासी विकास विभाग जिला बालाघाट में वर्ष 2013-14 से प्रश्न दिनांक तक कौन-कौन से कार्य कितनी-कितनी राशि के करवाये गये? नियुक्त कार्य एजेंसी के नाम सहित विकासखण्डवार एवं वर्षवार पूर्ण ब्यौरा देवें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार कार्य में से कौन–कौन से कार्य पूर्ण हैं कितने अपूर्ण हैं उक्त कार्य में से किस-किस कार्य के लिये -कितनी राशि का भुगतान चेक/नगद राशि के रूप में किया गया वर्षवार कार्यवार भुगतान कि गई राशि का पूर्ण ब्यौरा देवें। (ग) प्रश्नांश (क) में वर्णित कार्यों में से कौन-कौन से कार्य हैं जिनके पूर्ण किये बिना कार्य से अधिक राशि का भुगतान किया गया? कार्यवार किये गये भुगतान का पूर्ण ब्यौरा देवें। अपूर्ण कार्य होने की स्थिति में संबंधित कार्य एजेंसी पर क्या दण्डात्मक कार्यवाही की गई?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखानुसार कुल स्वीकृत 508 कार्यों में से 441 कार्य पूर्ण हैं। शेष 67 कार्य अपूर्ण/ अप्रारम्भ है। भुगतान की गई राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) प्रश्नांश (क) में वर्णित पूर्ण किये गये कार्यों में कार्य से अधिक राशि का भुगतान नहीं किया गया। कार्यवार भुगतान की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। अपूर्ण कार्यों को पूर्ण किये जाने के लिये संबंधित ठेकेदार, सहायक यंत्री एवं उपयंत्री को कारण बताओ सूचना पत्र जारी किया गया है।
विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति प्राधिकरण का बजट
[विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्धघुमक्कड़ जाति कल्याण]
29. ( क्र. 777 ) श्री मुकेश नायक : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) मध्यप्रदेश राज्य विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति विकास प्राधिकरण का वर्ष 2014–15, वर्ष 2015–16 का बजट कितना था और प्राधिकरण ने इन जातियों के विकास और कल्याण के लिये इस अवधि में किन मदो में कितना व्यय किया? (ख) वर्ष 2016 – 17 में प्राधिकरण का कुल कितना बजट था और जनवरी 2017 तक कितना धन किन कल्याणकारी मदों और विकास योजना पर खर्च हुआ? (ग) घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जातियों को एक स्थान पर बसाने और उन्हें रोजगार उपलब्ध कराने की सरकार की क्या योजना है और अब तक इस योजना पर काम करने से कितनी सफलता मिली है?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) मध्यप्रदेश राज्य विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति विकास अभिकरण हेतु वर्ष 2014-15 एवं वर्ष 2015-16 हेतु क्रमशः रूपये 140.00 लाख एवं रूपये 150.00 लाख का बजट प्रावधान स्थापना अनुदान मद अंतर्गत रखा गया था किन्तु अभिकरण में अध्यक्ष एवं अन्य अमले की नियुक्ति नहीं होने से राशि समर्पित की गयी है। अभिकरण के मद से किसी विकास योजना का संचालन नहीं किया जा रहा है। अतः शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) वर्ष 2016-17 में अभिकरण हेतु स्थापना अनुदान मद अंतर्गत राशि रूपये 90.60 लाख प्रावधान स्वीकृत हुआ है किन्तु अभिकरण में पृथक से अध्यक्ष एवं अन्य अमले की नियुक्ति न होने से प्रश्नाधीन अवधि तक कोई राशि व्यय नहीं की गयी है। (ग) राज्य शासन द्वारा घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जातियों को एक स्थान पर बसाने हेतु विमुक्त जाति आवास अनुदान योजना संचालित की जा रही है। उक्त योजना में वर्ष 2013-14 से अब तक 4654 आवास हेतु कुल राशि रूपये 2443.00 लाख अनुदान के रूप में स्वीकृत की गयी। इसके अतिरिक्त रोजगार उपलब्ध कराने के उद्देश्य से मुख्य मंत्री स्वरोजागर योजना अंतर्गत विभाग आगामी वर्ष 2017-18 से बजट प्रावधान कराया जाकर लाभ दिया जायेगा।
प्रदेश में इंटरमीडिएड (10+2) स्कूल खोले जाना
[स्कूल शिक्षा]
30. ( क्र. 793 ) श्री के.पी. सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में विगत तीन वर्षों में किस-किस विधान सभा क्षेत्र में कितने इंटरमीडिएट (10+2) स्कूल खोले गये हैं? विधानसभा क्षेत्रवार, ग्राम के नाम सहित जानकारी दें। (ख) क्या इन स्कूलों को स्वीकृत करने में पक्षपातपूर्ण रवैया अपनाया गया है? जहां अत्यधिक जरूरत थी ऐसे क्षेत्रों की उपेक्षा की गई है? यदि हाँ, तो इसके कारण क्या हैं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। शालाओं का उन्नयन मापदण्डों की पूर्ति एवं बजट प्रावधान अनुसार किया जाता है। सीमित वित्तीय संसाधनों की वजह से सभी शालाओं का उन्नयन संभव नहीं होता।
अनुसूचति जनजाति छात्रावास खोले जाना
[आदिम जाति कल्याण]
31. ( क्र. 794 ) श्री के.पी. सिंह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में विगत तीन वर्षों में किस-किस विधानसभा क्षेत्र में कितने अनुसूचित जनजाति छात्रावास खोले गए हैं? विधानसभा क्षेत्रवार, ग्राम के नाम सहित जानकारी दें। (ख) क्या इन छात्रावासों को स्वीकृत करने में पक्षपातपूर्ण रवैया अपनाया गया है? जहां अत्याधिक जरूरत थी ऐसे क्षेत्रों की उपेक्षा की गई हैं? यदि हाँ, तो इसके कारण क्या हैं?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
निजी अस्पतालों के मेडिकल स्टोर्स पर अधिक दाम पर बेची जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
32. ( क्र. 799 ) श्री आशीष गोविंद शर्मा : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) म.प्र. के भोपाल एवं इन्दौर शहर में गंभीर बिमारी कैंसर, हृदय रोग, किडनी प्रत्यारोपण लीवर ट्रान्सप्लांट जैसी बिमारियों के उपचार हेतु कितने अशासकीय अस्पताल है? (ख) क्या उक्त अशासकीय अस्पतालों के केम्पस में मेडिकल स्टोर्स भी हैं? अगर हाँ तो क्या कभी विभाग द्वारा इन मेडिकल स्टोर्स द्वारा बेची जानी वाली दवाइयों की जाँच करवाई गई है? (ग) उक्त अस्पताल केम्पस के मेडिकल स्टोर्स द्वारा जो दवाइयां बेची जाती हैं, क्या उक्त दवाइयों की कीमत बाजार मूल्य से अधिक कीमत पर बेची जाती है अगर विभाग का उत्तर नहीं है तो किस आधार पर बतावें? (घ) क्या कई अशासकीय अस्पतालों के केम्पस में संचालित मेडिकल स्टोर्स द्वारा मरीज की मजबूरी का फायदा उठाकर अधिक दामों में दवाइयों बेची जाने के संबंध में विभाग इन मेडिकल स्टोर्स की जाँच करवायेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) मध्यप्रदेश के भोपाल एवं इन्दौर शहर में गंभीर कैंसर, हृदयरोग, किडनी प्रत्यारोपण, लीवर ट्रांसप्लांट जैसी बीमारियों के उपचार हेतु 21 अशासकीय अस्पताल है। (ख) जी हाँ। जी हाँ। (ग) जी नहीं। औषधि पर अंकित अधिकतम विक्रय मूल्य ही आधार है। अधिक मूल्य पर बिक्री करने की कोई भी शिकायत प्रश्न दिनांक तक खाद्य एवं औषधि प्रशासन इंदौर एवं भोपाल में प्राप्त नहीं हुई है। (घ) जी हाँ। यदि कोई शिकायत/सूचना प्राप्त होती है तो विभाग नियमानुसार कार्यवाही करेगा।
पेयजल विहिन शालाएं
[स्कूल शिक्षा]
33. ( क्र. 800 ) श्री आशीष गोविंद शर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) देवास जिले अतंर्गत कुल कितने हायर सेकेण्डरी, हाई स्कूल माध्यमिक शाला एवं प्राथमिक शाला हैं? अलग अलग संख्या बतावें। (ख) देवास जिले के अतंर्गत ऐसी कितनी शालाऐ है जहां पर छात्र-छात्राओं को पीने के पानी व्यवस्था है? (ग) खातेगांव विधानसभा क्षेत्र अतंर्गत जो पेयजल विहिन शालाएं है? उन शालाओं में पेयजल की व्यवस्था कब से नहीं है? (घ) खातेगांव विधानसभा क्षेत्र की शालाओं में उचित पेयजल व्यवस्था किये जाने हेतु वरिष्ठ कार्यालय द्वारा क्या कार्यवाही की गई है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) देवास जिलान्तर्गत 1438 शासकीय प्राथमिक शालाएं, 618 शासकीय माध्यमिक शालाएं, 85 शासकीय हाईस्कूल एवं 80 हायर सेकेण्डरी स्कूल संचालित है। (ख) समस्त शालाओं में पेयजल सुविधा उपलब्ध है। (ग) एवं (घ) उत्तरांश (ख) के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। कुल 07 शासकीय प्राथमिक एवं 04 माध्यमिक शालाओं में हैंडपंप सुविधा है, किन्तु विगत एक माह से भूमि का जलस्तर नीचे जाने से पेयजल व्यवस्था प्रभावित है। समीपस्थ पेयजल स्त्रोत से ग्राम पंचायत की सहायता से पेयजल व्यवस्था करने हेतु जिला कार्यालय द्वारा शाला प्रधान को निर्देशित किया गया है, जिसका पालन किया जा रहा है।
मजरे टोले की शालाओं में अध्ययनरत छात्र-छात्राओं को साइकिल वितरण
[स्कूल शिक्षा]
34. ( क्र. 803 ) श्री आशीष गोविंद शर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) देवास जिले अंतर्गत मजरे टोले पर कितनी मा. शाला एवं प्रा. शाला संचालित हो रही हैं एवं किस वर्ष से? मजरे टोले एवं शाला का नाम बतावें। (ख) देवास जिले अंतर्गत मजरे टोले पर संचालित हो रही शालाओं में अध्ययनरत छात्र-छात्राओं को शासन द्वारा संचालित योजनाओं का लाभ कितने छात्र-छात्राओं को प्राप्त हुआ है? (ग) देवास जिले अंतर्गत मजरे टोले की शालाओं में अध्ययनरत छात्र-छात्राओं को क्या साइकिल वितरित की गई है? अगर हाँ तो किन-किन शालाओं के छात्र-छात्राओं को दी गई? शालाओं के नाम बतावें। (घ) खातेगांव विधान सभा क्षेत्र के अंतर्गत मजरे टोले पर संचालित हो रही शालाओं के छात्र-छात्राएं जो कि साइकिल पाने के पात्र थे किन्तु छात्र-छात्राओं को साइकिल नहीं दी गई? कारण बतावें एवं कब तक दी जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) देवास जिले अंतर्गत मजरे टोले पर 1 माध्यमिक विद्यालय तथा 162 प्राथमिक विद्यालय संचालित है जिनकी स्थापना वर्ष, मजरे टोले का नाम, शाला का नाम तथा दर्ज बच्चों की संख्या की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) देवास जिले के अंतर्गत मजरे टोले पर 1 माध्यमिक विद्यालय तथा 162 प्राथमिक विद्यालयों में कुल 6689 बच्चों को सर्व शिक्षा अभियान अंतर्गत निःशुल्क गणवेश तथा निःशुल्क पाठ्यपुस्तक का वितरण किया गया है। (ग) प्रावधान अनुसार पात्रता नहीं होने के कारण किसी भी छात्र- छात्राओं को निःशुल्क साइकिल वितरण नहीं किया गया। (घ) शासन के प्रावधान अनुसार एक ग्राम जिसमें माध्यमिक विद्यालय की सुविधा नहीं है और यदि वहां का कोई भी छात्र-छात्राएं अन्य ग्राम के माध्यमिक विद्यालय में कक्षा 6 वी में अध्ययन हेतु जाता है तो केवल वही छात्र-छात्राएं निःशुल्क साइकिल हेतु पात्र होगा। ''इस नियम के तहत् खातेगांव विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत मजरे टोले पर संचालित माध्यमिक शालाओं में से कोई छात्र-छात्रा निःशुल्क साइकिल हेतु पात्र नहीं पाया गया।
किराये के भवनों में संचालित स्कूल
[स्कूल शिक्षा]
35. ( क्र. 846 ) श्री अशोक रोहाणी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नगर निगम जबलपुर सीमांतर्गत संचालित कौन-कौन से स्कूल किराये के भवनों में संचालित हैं इन भवनों का मासिक किराया कितना-कितना है। इन भवनों में कितने-कितने कमरे हैं व कितनी-कितनी कक्षाएं लगती हैं। इन भवनों में छात्र-छात्राओं को कौन-कौन सी बुनियादी सुविधाएं/संसाधन उपलब्ध हैं? भवन स्वामियों का नाम, पता सहित सूची दें? (ख) प्रश्नांकित किन-किन भवनों का कब से कितना किराया नहीं चुकाया गया है एवं क्यों? भवनों का किराया चुकाने की क्या व्यवस्था हैं? शासन ने भवनों का किराया भुगतान करने हेतु कब से कितनी राशि आवंटित नहीं की है एवं क्यों? इसकी लिए जिला शिक्षा विभाग जबलपुर व जिला प्रशासन ने क्या प्रयास किये है वर्ष 2014-15 से 2016-17 तक की जानकारी दें। (ग) प्रश्नांकित में कौन-कौन से भवन जर्जर, कमजोर व खस्ताहाल हो गये हैं किन-किन भवनों में कब से कौन कौन सा सुधार व मरम्मत कार्य नहीं कराया गया है एवं क्यों? (घ) शासन ने किराये के भवनों में संचालित स्कूलों के भवनों का निर्माण कराने हेतु क्या योजना बनाई है? जिला शिक्षा विभाग जबलपुर व जिला प्रशासन ने किन-किन किराये के भवनों में संचालित स्कूलों के भवनों का निर्माण कराने हेतु कब कितनी राशि का प्राक्कलन बनाकर स्वीकृति हेतु भेजा है? शासन इन स्कूलों के भवनों का निर्माण कराना कब तक सुनिश्चित करेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) समस्त स्कूलों में किराये का भुगतान जनवरी 2017 तक किया जा चुका है। (ग) कोई भी शासकीय प्राथमिक स्कूल, भवन जर्जर, कमजोर एवं खस्ताहाल अवस्था में नहीं है। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं है। (घ) किराये के भवनों में संचालित स्कूलों के भवनों का निर्माण कराने हेतु वार्षिक कार्य योजना में प्रस्तावित किया है। भारत शासन से स्वीकृति प्राप्त होने पर ही निर्माण कराया जा सकेगा। सीमा बताया जाना संभंव नहीं है।
एकीकृत आदिवासी परियोजना का गठन
[आदिम जाति कल्याण]
36. ( क्र. 856 ) श्री रामलाल रौतेल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) एकीकृत आदिवासी विकास परियोजना सोहागपुर, पुष्पराजगढ़ का गठन कब एवं किन-किन विकासखण्डों एवं विधानसभा क्षेत्रों को मिलाकर बना है। परियोजना में अध्यक्ष नामांकित करने का नियम क्या है तथा किसे अध्यक्ष बनाया जा सकता है? वित्तीय वर्ष 2006 से अब तक सोहागपुर, पुष्पराजगढ़ में कौन-कौन अध्यक्ष रहे हैं। नाम एवं मूल पद क्या है? (ख) क्या विभाग अध्यक्ष नामांकित करने में नियम का अनुपालन नहीं कर रहा है? यदि हाँ, तो कारण बतायें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) एकीकृत आदिवासी विकास परियोजना सोहागपुर का गठन वर्ष 1977-78 में सोहागपुर, गोहपारू, बुढार, अनूपपुर, जेतहरी, कोतमा एवं पाली विकासखण्डों को मिलाकर बना है। तथा इसमें जयसिंहनगर, जैतपुर, अनूपपुर, कोतमा, पुष्पराजगढ़ एवं मानपुर विधानसभा क्षेत्र सम्मिलित हैं। इसी प्रकार एकीकृत आदिवासी विकास परियोजना, पुष्पराजगढ़ का गठन वर्ष 1976 में किया गया है। परियोजना क्षेत्र अंतर्गत विकासखण्ड पुष्पराजगढ़ शामिल है तथा विधानसभा क्षेत्र पुष्पराजगढ़ शामिल है। शासन आदेश एफ 23/41/96/3/25, दिनांक 19 मई 1997, के संदर्भ में परियोजना स्तर पर माननीय प्रभारी मंत्री के अनुमोदन से अध्यक्ष पद हेतु नाम प्रस्तावित किया जाता है तथा शासन स्तर से अध्यक्ष मनोनयन किया जाता है। परियोजना स्तर पर परियोजना सलाहकार मण्डल के अध्यक्ष पद हेतु राज्य शासन द्वारा अनुसूचित जनजाति वर्ग का मंत्री/ क्षेत्रीय सांसद/ विधायक/ जिला पंचायत के अध्यक्ष अथवा जनपद पंचायत अध्यक्ष का मनोनयन किया जाता है। वित्तीय वर्ष 2006 से अब तक एकीकृत आदिवासी विकास परियोजना शहडोल एवं पुष्पराजगढ़ में परियोजना सलाहकार मण्डल के मनोनित अध्यक्ष की जानकारी निम्नानुसार है।
1. एकीकृत आदिवासी विकास परियोजना- शहडोल (सोहागपुर), जिला शहडोल
क्रमांक |
अध्यक्ष का नाम |
मूल पद |
1 |
श्री जय सिंह मरावी |
विधायक विधानसभा क्षेत्र कोतमा |
2 |
श्री जय सिंह मरावी |
विधायक विधानसभा क्षेत्र जैतपुर |
3 |
श्री जय सिंह मरावी |
विधायक विधानसभा क्षेत्र जैतपुर |
4 |
श्री जय सिंह मरावी |
विधायक विधानसभा क्षेत्र जैतपुर |
2. एकीकृत आदिवासी विकास परियोजना- पुष्पराजगढ़, जिला अनूपपुर
क्रमांक |
अध्यक्ष का नाम |
मूल पद |
1 |
श्री सुदामा सिंह सिग्राम |
विधायक विधानसभा क्षेत्र पुष्पराजगढ़ |
2 |
श्री सुदामा सिंह सिग्राम |
विधायक विधानसभा क्षेत्र पुष्पराजगढ़ |
3 |
श्री फून्देलाल सिंह मार्को |
विधायक विधानसभा क्षेत्र पुष्पराजगढ़ |
(ख) विभाग द्वारा अध्यक्ष को नामांकित करने के नियमों का अनुपालन किया जा रहा है।
पिपलरांवा के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र को उन्नत करने हेतु
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
37. ( क्र. 888 ) श्री राजेन्द्र फूलचंद वर्मा : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा प्रदेश वासियों के बेहतर स्वास्थ्य एवं सुखमय जीवन के लिए प्राथमिक सामुदायिक जिला स्तर पर किन-किन जन कल्याणकारी योजनाओ के माध्यम से क्या-क्या सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं? (ख) क्या सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र के नगर पिपलरांवा जो कि सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र से लगभग 30 किलोमीटर कि दूरी पर स्थित होकर आस-पास के लगभग 20-25 ग्रामों के नागरिक यहां से जुडे हुए है इनके उचित ईलाज हेतु नगर के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र को सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में उन्नत किये जाने कि योजना है या नहीं यदि हाँ, तो क्या? यदि नहीं, तो क्यों नहीं? (ग) क्या विभाग द्वारा क्षेत्र के सैकड़ों हजारों रहवासियों के बेहतर इलाज वा शीघ्र स्वास्थ सुविधाएं उपलब्ध कराने कि दृष्टि में नगर को सामुदयिक केन्द्र कि सौगात दी जावेगी या नहीं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। जनसंख्या के निर्धारित मापदंड अनुसार उन्नयन की पात्रता नहीं होने से। (ग) जी नहीं।
दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों का नियमितीकरण
[स्कूल शिक्षा]
38. ( क्र. 892 ) श्री राजेन्द्र फूलचंद वर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन द्वारा कंटेंजेसी/दैनिक वेतन भोगियों कर्मचारियों को नियमित करने हेतु कोई कार्यवाही चल रही है? (ख) यदि हाँ, तो देवास जिले के कितने कर्मचारियों को किन-किन पद पर नियमित किया जाना है? (ग) क्या नियमितीकरण के लिए पद रिक्त हैं? यदि नहीं, तो क्या शासन द्वारा पदोन्नति हेतु योग्य कर्मचारियों की पदोन्नति कर रिक्त पदों पर नियमितीकरण की प्रक्रिया करने का कोई विचार है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा समय समय पर निर्देश जारी किये गये है तद्नुसार सभी विभागों में कार्यवाही किए जाने के निर्देश है। (ख) देवास जिले में कंटेंजेसी/दैनिक वेतन भोगी का कोई भी कर्मचारी कार्यरत नहीं है। (ग) प्रश्नांश ‘ख‘ के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
प्राथमिक/माध्यमिक एवं हाईस्कूल भवनों का निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
39. ( क्र. 954 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) हरदा जिले में विकास खंड हरदा/खिरकिया/टिमरनी में कितने-कितने प्राथमिक/माध्यमिक/ हाईस्कूल स्कूल भवन निर्माणाधीन हैं? (ख) क्या सभी भवनों का निर्माण कार्य पूर्ण कर लिया गया है? (ग) यदि हाँ, तो उन्हें कब तक विभाग को हस्तांतरित कर दिया जावेगा? (घ) यदि नहीं, तो उसका क्या कारण है व देरी के लिये कौन जिम्मेदार है? सम्बन्धित जिम्मेदार पर क्या कार्यवाही की गई। निर्माण कार्य कब तक पूरा कर लिया जावेगा।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) हरदा जिले के वि.ख. हरदा में प्राथमिक 02, माध्यमिक 03, हाईस्कूल 02, वि.ख. टिमरनी में प्राथमिक 02, माध्यमिक 12, हाईस्कूल 02 एवं वि.ख. खिरकिया में प्राथमिक 04 माध्यमिक 03 एवं हाईस्कूल 03 निर्माणाधीन है। (ख) जी नहीं। उपरोक्त निर्माण कार्य प्रगतिरत/प्रक्रियाधीन है। (ग) हरदा जिले में सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत निर्माणाधीन प्राथमिक एवं माध्यमिक भवनों की कुल संख्या 26 है जिनके संबंध में एस.डी.एम. कोर्ट में आर.आर.सी. की कार्यवाही प्रचलन में है। शेष कार्य निर्माणाधीन है। निर्माण एजेंसी द्वारा निर्माण कार्य पूर्ण कराने के उपरांत विभाग को हस्तांतरित कर दिया जाएगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (घ) शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शाला भवनों के निर्माण के संबंध में पालक शिक्षक संघ तथा ग्राम पंचायत को निर्माण एजेंसी बनाया गया। एजेंसी की उदासीनता एवं राशि गबन के कारण उक्त निर्माण कार्य अपूर्ण है। निर्माण एजेंसी से राशि वसूली की कार्यवाही एस.डी.एम. कोर्ट में आर.आर.सी. की कार्यवाही प्रचलन में है। राशि वसूली उपरांत निर्माण कार्य पूर्ण हो सकेगा। हाई स्कूल व हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
अम्बाह किला में संचालित विद्यालयों को कंडम घोषित करना
[स्कूल शिक्षा]
40. ( क्र. 964 ) श्री सत्यपाल सिंह सिकरवार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मुरैना जिले की अम्बाह तहसील के किला परिसर में चार शासकीय स्कूल संचालित हैं। शासकीय एक्सीलेंस, शासकीय प्राथमिक कन्या विद्यालय, शासकीय बालक प्राथमिक विद्यालय, शासकीय हाई स्कूल इनमें छात्रों की कितनी संख्या है प्रत्येक विद्यालय की अलग-अलग जानकारी दी जावें? (ख) क्या किला परिसर अम्बाह में ही सैकड़ों वर्ष पुराना स्कूल भवन स्थित है जिसे बीस वर्ष पूर्ण कंडम घोषितकर भवन को तोड़ने हेतु आदेशित किया था जिसे आज वर्ष 2017 तक हटाया नहीं गया है? क्यों? (ग) क्या उक्त पुराने भवन परिसर में शासकीय विद्यालयों के छात्र उसमें आते-जाते रहते हैं इस कारण कहीं गंभीर घटना न हो इसकी आशंका बनी रहती है उसे कब तक गिराया जायेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं, किला परिसर में विद्यालय नवीन भवन में संचालित है। पुराने किले के भवन में कोई विद्यालय संचालित नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उक्त पुराने भवन परिसर में कोई शासकीय शाला संचालित नहीं होने से उक्त भवन परिसर में शासकीय शालाओं के छात्र/छात्राएं आते जाते नहीं है। अत: शेषांश का प्रश्न ही उत्पन्न नहीं होता।
संविदा शाला शिक्षक की उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में पदस्थी
[स्कूल शिक्षा]
41. ( क्र. 981 ) डॉ. मोहन यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) संविदा शाला शिक्षक वर्ग-3 के शिक्षण संबंधी नियमों की प्रति उपलब्ध कराते हुये यह जानकारी प्रदान करें कि क्या संविदा शिक्षक वर्ग-3 द्वारा उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में शैक्षणिक कार्य करवाया जा सकता है? अथवा नहीं? प्रथम आदेश के पालन में उपस्थिति दे देने के पश्चात् तीन वर्ष के पूर्व संशोधन आदेश जारी किया जा सकता है अथवा नहीं? (ख) प्रश्नांश (क) की जानकारी के अनुसार क्या जनपद पंचायत उज्जैन के नियुक्ति आदेश क्रमांक 1699 दिनांक 08.07.2013 के पालन में आशा विश्वकर्मा द्वारा ई.जी.एस. सिलारी ने नियुक्ति उपरांत दिनांक 12.07.2013 को शा.उ.मा.वि. पानबिहार में उपस्थिति देने के उपरांत भी आदेश क्रमांक–2104 दिनांक 05.09.2016 को नियम विरूद्ध संविदा शिक्षक वर्ग–3 को उच्चतर मा. विद्यालय में पदस्थ कर दिया गया? प्रा.वि. आवलिया में पदस्थ करने के लिये कौन अधिकारी दोषी है? क्या नियम विरूद्ध जारी आदेश निरस्त किया जावेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है, जी नहीं। (ख) जनपद पंचायत घटिया के आदेश क्रमांक 1699, दिनांक 08.07.2013 द्वारा श्रीमती आशा विश्वकर्मा की नियुक्ति ई.जी.एस सिलारी में की गई थी। लोक शिक्षण संचालनालय से नव नियुक्ति महिला संविदा शाला शिक्षकों के निकाय के भीतर पद स्थापना स्थान में परिवर्तन के प्रदान किये गये अवसर अनुसार प्राप्त स्वीकृति के क्रम में जनपद पंचायत घटिया द्वारा आदेश क्रमांक 2104, दिनांक 05.09.2013 से श्रीमती आशा विश्वकर्मा का पदांकन ई.जी.एस. सिलारी से संशोधित कर शास. प्राथ. विद्यालय आवलिया किया गया है। श्रीमती आशा विश्वकर्मा के संबंध में उल्लेखित आदेश क्रमांक 2104, दिनांक 05.09.2016 जारी नहीं हुआ है। अपितु संकुल प्राचार्य द्वारा अपने पत्र दिनांक 13.07.2013 द्वारा श्रीमती आशा विश्वकर्मा का उपायोजन शैक्षणिक व्यवस्था हेतु शा.उ.मा.वि. पान बिहार में किया गया था। श्रीमती आशा विश्वकर्मा, संविदा शाला शिक्षक श्रेणी-3 शास. प्रा.वि. आवलिया में कार्यरत है इस संबंध में जाँच हेतु जिला शिक्षा अधिकारी उज्जैन को लिखा गया है। जाँच प्रतिवेदन के गुण दोष के आधार पर कार्यवाही की जावेगी। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
वार्षिक परीक्षा के प्रश्न पत्रों का वितरण
[स्कूल शिक्षा]
42. ( क्र. 982 ) डॉ. मोहन यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शैक्षणिक सत्र 2012-13, 2013-14 में कक्षा 1 से 8 तक वार्षिक परीक्षा के प्रश्न पत्रों के वितरण हेतु शासन द्वारा क्या निर्देश जारी किये गये थे? जानकारी उपलब्ध करावें? उज्जैन जिले में वित्तीय वर्ष 2012-13, 2013-14 में विकासखण्डों द्वारा किस प्रकार से प्रश्न पत्रों का वितरण किया गया? (ख) प्रश्न पत्रों के क्रय करने के संबंध में किस प्रक्रिया को अपनाया गया? जारी की गई विज्ञप्ति, प्राप्त कोटेशनों की जानकारी उपलब्ध कराते हुये प्रश्न पत्रों के भुगतान के संबंध में प्राप्त बिल तथा भुगतान किये गये वाउचर, चेक क्र. आदि समस्त जानकारी मय दस्तावेजों के विकासखण्डवार प्रदान करें? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) की जानकारी अनुसार क्या जिले के कुछ विकासखण्डों द्वारा नियमों की अवहेलना करते हुये शाला स्तर पर प्रश्न पत्रों के वितरण की व्यवस्था नहीं करते हुये विकासखण्ड स्त्रोत समन्वयकों द्वारा स्वयं को लाभान्वित करते हुये उक्त कार्य किया गया? यदि हाँ, तो दोषी व्यक्तियों का नाम बताते हुये उनकी विरूद्ध क्या कार्यवाही की जावेगी एवं कब तक कार्यवाही की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) निर्देश पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र '1' पर है। उज्जैन जिले में वित्तीय वर्ष 2012-13 में कक्षा-1 से 4 एवं कक्षा- 6,7 में वार्षिक परीक्षा के प्रश्नपत्रों का वितरण शाला स्तर पर किया गया था एवं कक्षा-5वीं एवं 8वीं के प्रश्नपत्रों का वितरण बी.आर.सी.सी./जनशिक्षा केन्द्र प्रभारी के माध्यम से कराया गया था। वित्तीय वर्ष 2013-14 में कक्षा-1 से 8 तक वार्षिक परीक्षा के प्रश्नपत्रों का वितरण शाला स्तर पर किया गया था। (ख) वित्तीय वर्ष 2012-13 में कक्षा-5वीं व 8वीं के प्रश्नपत्रों का मुद्रण व वितरण भण्डार क्रय नियमानुसार जिला शिक्षा अधिकारी उज्जैन द्वारा समचार पत्र में निविदा प्रकाशित कर निम्न दर वाली फर्म को मुद्रण आदेश जारी कर मुद्रण कार्य कराया गया। इसकी समाचार विज्ञप्ति, प्राप्त कोटेशन, प्रश्नपत्रों के भुगतान संबंधी बिल तथा भुगतान किए वाउचर, चेक क्र. आदि समस्त जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्टि के प्रपत्र- '2' अनुसार है। वित्तीय वर्ष 2012-13 में कक्षा 5वीं एवं 8वीं को छोड़कर शेष कक्षाओं के एवं 2013-14 में कक्षा-1 से 8 के प्रश्नपत्र का निर्माण शाला स्तर पर किया गया एवं इसकी आवश्यकतानुसार संबंधित शाला द्वारा प्रिटिंग/ फोटोकापी करवाई गई। (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के उत्तर के प्रकाश में प्रश्नपत्रों के मुद्रण संबंध क्रय की कार्यवाही विकासखण्ड स्तर से नहीं की गई। अत: इसमें किसी को भी लाभ नहीं पहुँचाया गया है। इस परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्नांश निरंक है।
जिला चिकित्सालय का उन्नयन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
43. ( क्र. 1023 ) श्री दुर्गालाल विजय : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के तारां.प्र.सं. 68 क्रमांक 1031 दिनांक 09.12.2016 के प्रश्नांश (क) के उत्तर में जानकारी दी थी कि 100 बिस्तरीय जिला चिकित्सालय श्योपुर को 200 बिस्तरीय में उन्नयन करने का प्रस्ताव परियोजना परीक्षण समिति शासन की ओर यथाशीघ्र भेजा जावेगा? यदि हाँ, तो क्या प्रस्ताव भेज दिया है? यदि नहीं, तो कब तक भेजा जावेगा? (ख) चिकित्सालय के उन्नयन के संबंध में चालू वित्त वर्ष में प्रश्नकर्ता द्वारा विभागीय मंत्री को प्रेषित पत्रों पर क्या कार्यवाही की गई? (ग) क्या चिकित्सालय में सामान्य स्थिति में प्रतिदिन 500 से अधिक मरीज उपचार हेतु आते हैं मौसमी बीमारियों के सीजन में ये संख्या दो तीन गुना हो जाती है ऐसी स्थिति में भर्ती मरीजों को गैलरियों व बेंन्चो पर लेटकर उपचार कराना पड़ता है उन्हें कठिनाइयां आती है इस तथ्य को परि अता. प्र.सं. 13 (क्रमांक 1503) दिनांक 14.03.2016 के प्रश्नांश (ख) में स्वीकारा है? (घ) यदि हाँ, तो चिकित्सालय में जगह की कमी व मरीजों की कठिनाइयों के मद्देनजर उन्नयन के प्रस्ताव को परियोजना परीक्षण समिति शासन से स्वीकृत कराने उपरांत इसे वर्ष 2017-18 के बजट में शामिल कर चिकित्सालय के उन्नयन की घोषणा शासन सदन में ही करेगा? यदि नहीं, तो क्यों?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। जी हाँ। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) प्रश्नांश (क) के उत्तर अनुसार। (ग) जी हाँ। (घ) जी हाँ, प्रस्ताव वर्ष 2017-18 के बजट में शामिल करने के प्रयास किये जावेंगे।
बड़ोदा सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में रिक्त पद व सुविधाएं
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
44. ( क्र. 1024 ) श्री दुर्गालाल विजय : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) श्योपुर विधान सभा क्षेत्रान्तर्गत वर्तमान में बड़ौदा सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में किस-किस श्रेणी के चिकित्सकों व अन्य अधीनस्थ स्टॉफ के कौन-कौन से पद स्वीकृत/भरे/ कब से व किन कारणों से रिक्त पड़े हैं इन्हें भरने हेतु क्या प्रयास किये गये? कौन-कौन सी सुविधाएं उपलब्ध/अनुपलब्ध हैं कब तक उपलब्ध कराई जावेगी? (ख) क्या उक्त केन्द्र में वर्तमान में दो चिकित्सा अधिकारी पदस्थ हैं में से एक बी.एम.ओ.शीप के प्रभार के कारण कार्यालयीन कार्य में पूर्णकालिक व्यस्त रहते हैं? मात्र एक चिकित्सक प्रतिदिन उपचार हेतु आने वाले 200-250 मरीजों की उपचार व्यवस्था संभाल नहीं पाते एवं मरीज परेशान होते हैं? (ग) क्या केन्द्र में महिला रोग विशेषज्ञ के अभाव में महिलाओं को उपचार व प्रसूती कार्य में कठिनाई आती है तथा विवश होकर उन्हें इस हेतु अन्यत्र जाना पड़ता है? क्या शासन जिला चिकित्सालय में पदस्थ महिला चिकित्सकों में से किसी एक महिला चिकित्सक की व्यवस्था उक्त केन्द्र में करेगा तथा मरीजों की परेशानियों के मद्देनजर प्रश्नांश (क) में वर्णित रिक्त पदों को यथाशीघ्र भरेगा, यदि नहीं, तो क्यों?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। प्रथम श्रेणी विशेषज्ञों के पद शत्-प्रतिशत पदोन्नति से भरे जाने का प्रावधान है एवं पर्याप्त मात्रा में स्नातकोत्तर चिकित्सक पदोन्नति हेतु उपलब्ध नहीं होने के कारण पद रिक्त हैं। सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, बड़ौदा में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के मापदण्ड अनुसार 48 प्रकार की निःशुल्क जाँच, 107 प्रकार की निःशुल्क औषधि एवं मरीज व प्रसूताओं को अस्पताल पर लाने के लिये निःशुल्क वाहन सुविधा उपलब्ध है। संस्था में विभाग से संबंधित समस्त शासकीय योजनाओं का क्रियान्वयन किया जा रहा है। (ख) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, बड़ौदा में वर्तमान में एक बंधपत्र चिकित्सक एवं 02 नियमित चिकित्सा अधिकारी कार्यरत हैं। पदस्थ 02 चिकित्सकों में से एक डॉ. सीयाराम मीणा वर्तमान में खण्ड चिकित्सा अधिकारी के प्रभार में है तथा दो चिकित्सा अधिकारी पूर्णकालिक संस्था में रहकर स्वास्थ्य सेवायें आम-जन का प्रदान कर रहे हैं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बड़ौदा पर सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के मापदण्ड अनुसार सभी स्वास्थ्य सुविधायें उपलब्ध है। प्रत्येक माह की 09 तारीख को स्त्रीरोग विशेषज्ञ के द्वारा संस्था पर उपस्थित होकर प्रसूती महिलाओं की जाँच की जाती है एवं संस्था पर कार्यरत स्टाफ नर्स एस.बी.ए., स्कील लैब प्रशिक्षण प्राप्त है, जो चिकित्सकों के मार्ग दर्शन में महिलाओं स्वास्थ्य लाभ प्रदान करते है। सी.एच.सी. बड़ौदा से जिला चिकित्सालय श्योपुर की दूरी लगभग 22 कि.मी. है। जिला चिकित्सालय श्योपुर में सभी प्रकार की स्वास्थ्य सेवायें उपलब्ध है। महिला चिकित्सक की उपलब्धता अनुसार पदस्थापना संबंधी कार्यवाही की जाती है, वर्तमान में विभाग में स्त्रीरोग विशेषज्ञ/स्त्रीरोग योग्यता की अत्यधिक कमी के कारण पदपूर्ति हेतु निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है।
सहायक अध्यापक संवर्ग की पदोन्नति
[स्कूल शिक्षा]
45. ( क्र. 1101 ) श्री बलवीर सिंह डण्डौतिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा कार्यरत सहायक अध्यापकों की पदोन्नति हेतु क्या नियम प्रक्रिया प्रचलन में है? प्रति सहित जानकारी दी जावे। (ख) क्या स्कूल शिक्षा विभाग के आयुक्त कार्यालय भोपाल द्वारा विभागीय पदोन्नति हेतु जिला पंचायत मुरैना को कई बार सहायक अध्यापकों की वरिष्ठता सूची भेजने हेतु निर्देशित किया गया था व साथ ही जिला पंचायत मुरैना द्वारा शिक्षा विभाग के आयुक्त का संदर्भित पत्रों के अनुसार जिला शिक्षा अधिकारी मुरैना को भी कई बार निर्देश देते हुए वरिष्ठता सूची भेजने के सख्त निर्देश दिये गये थे? (ग) यदि हाँ, तो अंतिम पत्र 19/04/2014 के आदेश के पालन में 5 जून 2014 तक पदोन्नति किये जाने के सख्त निर्देश थे जो कि आज प्रश्न प्रस्तुत दिनांक तक भी पदोन्नति की कार्यवाही नहीं हुई है व लोक शिक्षण संचालनालय के पत्र व जिला पंचायत मुरैना के पत्रों की प्रति भी दी जावे। जिससे पात्र सहायक अध्यापकों को पदोन्नति से वंचित है। क्या म.प्र. शासन उपरोक्त पदोन्नति में लापरवाही करने वाले अधिकारियों-कर्मचारियों के खिलाफ कार्यवाही करेगा? यदि हाँ, तो निश्चित समयावधि दिनांक सहित दी जावे।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। (ख) जी नहीं, अपितु वरिष्ठता सूची जारी करने एवं पदोन्नति करने के निर्देश सभी संबंधित अधिकारियों को दिये गये। (ग) दिनांक 19.04.2014 नहीं, अपितु दिनांक 29.04.2014 के द्वारा निर्देश दिये गये। मुरैना जिला अन्तर्गत 74 अध्यापकों को वरिष्ठ अध्यापक के पद पर पदोन्नति के आदेश जारी कर दिये गये हैं। सहायक अध्यापकों की वरिष्ठता सूची का संधारण दिनांक 01.04.2015 की स्थिति में अनंतिम वरिष्ठता सूची का प्रकाशन किया जाकर दावे आपत्तियां प्राप्त की जाकर अंतिम वरिष्ठता सूची के प्रकाशन किये जाने की कार्यवाही प्रचलित है। इसी मध्य पदोन्नति में आरक्षण पर उद्भुत याचिका पर मान. उच्च न्यायालय जबलपुर के निर्णय के विरूद्ध माननीय सर्वोच्च न्यायालय दिल्ली में विचाराधीन याचिका के निराकरण के पश्चात् नियमानुसार पदोन्नति की जाना संभव होगा। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार है।
बड़वानी में आयोजित कार्यक्रम में अनियमितता
[आदिम जाति कल्याण]
46. ( क्र. 1181 ) श्री बाला बच्चन : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दिनांक 21-01-17 को बड़वानी में आयोजित राज्य स्तरीय अनुसूचित जनजाति सम्मेलन में कुल कितना व्यय हुआ? संपूर्ण व्यय की जानकारी देवें। किन-किन फर्मों को किन-किन कार्यों के लिए कितना-कितना भुगतान किया? (ख) इसके लिए टेंडर प्रक्रिया की पूरी जानकारी देवें। यदि टेंडर प्रक्रिया नहीं की गई तो क्यों? नियम सहित बतावें। (ग) इस कार्यक्रम में कितने हितग्राहियों को किस विषय का प्रशिक्षण दिया गया? प्रशिक्षण विषय, प्रशिक्षण अवधि सहित बतावें। प्रशिक्षणकर्ताओं की न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता भी बतावें। (घ) यदि प्रशिक्षण नहीं कराया तो कार्यक्रम में इसका उल्लेख क्यों किया गया? इसके दोषी अधिकारियों पर शासन कब तक कार्यवाही करेगा? टेंडर न निकालने वाले अधिकारियों पर कार्यवाही कब होगी?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) दिनांक 21.01.2017 को बड़वानी जिले में आयोजित राज्य स्तरीय अनुसूचित जनजाति सम्मेलन में विभिन्न फर्मों/दुकानदारों के वास्तविक देयक आज पर्यन्त अप्राप्त है। देयक अप्राप्त होने से सम्मलेन के आयोजन पर हुये वास्तविक व्यय का आंकलन नहीं किया जा सका है। (ख) जिला स्तर कार्य भण्डार क्रय नियम 2015 का पालन करते हुये कराये गये हैं। मंच एवं पंडाल व्यवस्था के लिये ‘‘माध्यम‘‘ को एजेंसी बनाया गया था। (ग) आयोजित राज्य स्तरीय अनुसूचित जनजाति सम्मेलन में लगभग 22000 हितग्राहियों को विभिन्न विभागों के स्टाल लगाकर मध्यप्रदेश शासन की विभागीय योजनाओं की जानकारी एवं एक दिवसीय प्रशिक्षण दिया गया। प्रशिक्षणकर्ता की न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता हायर सेकण्ड्री पास है। (घ) प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
राजगढ़ विधानसभा के स्कूलों में मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराना
[स्कूल शिक्षा]
47. ( क्र. 1218 ) श्री अमर सिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजगढ़ जिले में किन-किन स्थानों पर शासकीय हायर सेकेण्डरी/हाईस्कूल/माध्यमिक विद्यालय/प्राथमिक विद्यालय संचालित हैं? उनमें कुल कितने छात्र-छात्रायें दर्ज हैं? विकासखण्डवार पृथक-पृथक जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) उक्त संचालित शासकीय हायर सेकेण्डरी/हाईस्कूल/माध्यमिक विद्यालय/प्राथमिक विद्यालय में ऐसे कितने विद्यालय हैं जिनके पास स्वयं का भवन नहीं हैं? उक्त विद्यालयों में कब तक भवन स्वीकृत किये जावेगें? (ग) उक्त संचालित शासकीय हायर सेकेण्डरी/हाईस्कूल/माध्यमिक विद्यालय/प्राथमिक विद्यालय में ऐसे कितने विद्यालय हैं जिनके पास स्वयं का भवन है परन्तु उनमें बाउण्ड्रीवॉल नहीं होने से अतिक्रमण हो रहा है? उक्त विद्यालयों में कब तक बाउण्ड्रीवॉल स्वीकृत की जावेगी? (घ) उक्त संचालित शासकीय हायर सेकेण्डरी/हाईस्कूल/माध्यमिक विद्यालय/प्राथमिक विद्यालय में ऐसे कितने विद्यालय हैं जिनके पास किचन शेड, बालक-बालिकाओं के लिये शौचालय तथा पीने के लिये पानी की व्यवस्था नहीं है? उनमें कब तक व्यवस्था कर दी जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। (ख) जिले की सभी शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं के पास स्वयं का भवन उपलब्ध है। कुल 11 हायर सेकेण्डरी तथा 46 हाईस्कूल भवन विहीन है। भवन निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा। (ग) जिलांतर्गत संचालित 203 उ.मा.वि/हाईस्कूल में से 145 उ.मा.वि./हाईस्कूल में स्वयं के भवन है, इनमें से 90 उ.मा.वि./हाईस्कूल ऐसे हैं जिनमें बाउण्ड्रीवॉल नहीं है। 05 हाईस्कूल एवं 01 उ.मा.वि. में अतिक्रमण की स्थिति बनी हुई है। बाउण्ड्रीवॉल का निर्माण बजट उपलब्धता पर निर्भर करेगा। कुल 2648 शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाएं हैं जिनके पास स्वयं का भवन तो हैं, इनमें से 1744 शास.प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल नहीं है। वार्षिक कार्य योजना 2017-18 में बाउण्ड्रीवॉल निर्माण प्रस्तावित है। भारत शासन से स्वीकृति प्राप्त होने पर निर्माण किया जा सकेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (घ) जिले की सभी प्राथमिक/माध्यमिक/हाईस्कूल/उ.मा.वि. में शौचालय एवं पीने के पानी की व्यवस्था उपलब्ध है। 656 माध्यमिक शालाओं में किचन शेड की आवश्यकता है। किचन शेड का निर्माण पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग द्वारा कराया जाता है एवं बजट की उपलब्धता पर निर्भर है। समय-सीमा बताना संभव नहीं है।
बस्ती विकास के अंतर्गत निर्माण
[अनुसूचित जाति कल्याण]
48. ( क्र. 1252 ) श्री नरेन्द्र सिंह कुशवाह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या कार्यालय कलेक्टर जिला भिण्ड के द्वारा अनुसूचित जाति में बस्ती विकास के अंतर्गत निर्माण कार्यों के लिए आदेश क्रमांक 2289 दिनांक 27.12.2016 राशि 9778000.00 बीस ग्राम पंचायतों को राशि जारी की गई? यदि हाँ, तो किस जनप्रतिनिधि की अनुशंसा पर प्रकरण स्वीकृत किया गया? छायाप्रति सहित जानकारी दें। (ख) कार्यालय अनुसूचित जाति कल्याण वल्लभ भवन भोपाल 23.15/2014/25.4 दिनांक 28.7.2014 कार्यालय आयुक्त अनुसूचित जाति विकास मध्यप्रदेश भोपाल के क्रमांक 10302 अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजना के अंतर्गत राशि स्वीकृत करने के लिए क्या प्रावधान निहित किए गए हैं? (ग) ग्राम पंचायत श्यामपुरा जनपद पंचायत मेहगांव में आदेश क्रं. 2289 दिनांक 27.12.2016 में राशि पाँच लाख बस्ती विकास के अंतर्गत स्वीकृत की गई है? यदि हाँ, तो वहां पर कितनी अनुसूचति जाति जनसंख्या है? (घ) प्रश्नांश (ग) में असत्य प्रकरण स्वीकृत करने के लिए कौन दोषी है प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही की गई?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। स्वीकृत 20 कार्यों में से 01 कार्य ग्राम पंचायत की अनुशंसा पर एवं शेष कार्य मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जनपद पंचायतों की अनुशंसा पर स्वीकृत किये गये हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। (ख) बस्ती विकास योजना नियम 2014 की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है। (ग) जी हाँ। ग्राम पंचायत, श्यामपुरा के ग्राम एमनपुरा में अनुसूचित जाति की जनसंख्या 211 है। (घ) असत्य प्रकरण स्वीकृत नहीं किया गया है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अनुसूचित जाति बस्ती विकास राशि का दुरूपयोग
[अनुसूचित जाति कल्याण]
49. ( क्र. 1253 ) श्री नरेन्द्र सिंह कुशवाह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) परि. अता. प्रश्न संख्या-42 (क्रं. 650) दिनांक 9 दिसम्बर 2016 के परिप्रेक्ष्य में भिण्ड विधानसभा क्षेत्रांतर्गत क्या अनुसूचित जाति बस्ती के प्रकरण स्वीकृत न कर अन्यत्र प्रकरण स्वीकृत किए जा रहे हैं? यदि हाँ, तो इसके लिए कौन दोषी हैं? क्या कार्यवाही की गई? (ख) भिण्ड जिले के अंतर्गत 40 प्रतिशत से अधिक कौन से ग्राम हैं? अभी तक विगत पाँच वर्षों में कितनी राशि के कार्य हो चुके हैं? विधानसभा क्षेत्रवार जानकारी दें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी नहीं। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) शासन द्वारा अनुमोदित भिण्ड जिले के अंतर्गत अनुसूचित जाति बाहुल्य निवासियों की 40 प्रतिशत से अधिक ग्रामों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। विगत पाँच वर्षों में स्वीकृत कार्यों की विधानसभावार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है।
आदिवासी उपयोजना क्षेत्र विकास निधि का उपयोग एवं उसका क्रियान्वयन
[आदिम जाति कल्याण]
50. ( क्र. 1317 ) श्री राजकुमार मेव : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भारत सरकार से आदिवासी उप योजना क्षेत्र विकास हेतु विशेष केन्द्रीय सहायता व संविधान के अनुच्छेद 275 (1) तथा अन्य मद में कितनी-कितनी राशि शासन को वर्ष 2014-15 से प्रश्न दिनांक तक प्राप्त हुई? उक्त राशि में से किस-किस परियोजना क्षेत्र में कितनी-कितनी राशि आंवटित की गई एवं कितनी राशि व्यय की गई? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में खरगोन जिले में कितनी परियोजनाएं संचालित की जा रही है इनके प्रभारी वर्तमान में कौन-कौन है किन-किन परियोजनाओं को कितनी-कितनी राशि किस-किस कार्य के लिए प्राप्त हुई एवं कितनी व्यय की गई? (ग) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में महेश्वर परियोजना के तहत आदिवासी उपयोजना क्षेत्र विकास एवं विशेष केन्द्र सहायता योजना के विभिन्न मदों में वर्ष 2014-15 से प्रश्न दिनांक तक कितनी राशि प्राप्त हुई? प्राप्त राशि किस-किस विभाग को किस-किस कार्य के लिए स्वीकृत की गई वर्तमान में कार्यों की क्या स्थिति है? (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में महेश्वर परियोजना के तहत वर्ष 2016-17 की कार्ययोजना अनुसार कितनी राशि का आवंटन प्राप्त हुआ तथा कितना आवंटन प्राप्त होना शेष है? प्राप्त आवंटन में से किस-किस कार्य के लिए कितनी-कितनी राशि किस-किस विभाग को आवंटित की गई एवं वर्तमान में उसके उपयोग की क्या स्थिति है?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) प्रश्नांश अंतर्गत जानकारी निम्नानुसार है:-
मद |
प्राप्त राशि लाखों में |
||
वर्ष 2014-15 |
वर्ष 2015-16 |
वर्ष 2016-17 |
|
विशेष केन्द्रीय सहायता |
15274.22 |
11501.21 |
14174.81 |
संविधान के अनुच्छेद 275 (1) |
17321.41 |
14845.15 |
14715.22 |
वन बन्धु कल्याण योंजना |
1000.00 |
1909.28 |
0.00 |
परियोजना क्षेत्रवार राशि का आवंटन एवं व्यय की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘एक‘‘ अनुसार है। (ख) खरगोन जिले में संचालित 02 परियोजनाओं की जानकारी निम्नानुसार है : 1. एकीकृत आदिम जाति विकास परियोजना खरगोन- श्री महेन्द्र सिंह कवछे, अनुविभागीय अधिकारी, राजस्व खरगोन 2. एकीकृत आदिम जाति विकास परियोजना महेश्वर- श्री बी.एस.सोलंकी, अनुविभागीय अधिकारी, राजस्व मण्डलेश्वर शेष जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘दो‘‘ एवं ''तीन'' अनुसार है। (ग) प्रश्नांकित अवधि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘तीन‘‘ अनुसार है। (घ) प्रश्नांश अंतर्गत वित्तीय वर्ष 2016-17 की कार्ययोजना अनुसार वर्तमान में राशि आवंटित नहीं की गई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
आयुष अधिकारी के विरूद्ध की गई शिकायतों की जाँच एवं कार्यवाही
[आयुष]
51. ( क्र. 1347 ) डॉ. गोविन्द सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मुख्य सचिव कार्यालय मंत्रालय, भोपाल के पत्र क्रमांक 9046/अ.स./मु.स./2016 भोपाल, दिनांक 06 दिसम्बर 2016 के द्वारा प्रमुख सचिव, आयुष विभाग को जिला आयुष अधिकारी ग्वालियर के विरूद्ध अनियमितताओं एवं भ्रष्टाचार की जाँच कर शिकायतकर्ता को अवगत कराने का निर्देश दिया था? (ख) यदि हाँ, तो शिकायत की जाँच किस अधिकारी द्वारा कराई गई? जाँच प्रतिवेदन दें। जाँच पूर्ण कर कब तक कार्यवाही की जावेगी? (ग) राजपत्रित अधिकारी संघ म.प्र. के संरक्षक डॉ. बी.एम. बौहरे द्वारा 1 जनवरी 2016 से 31 दिसम्बर 2016 तक प्रमुख सचिव एवं आयुक्त आयुष विभाग म.प्र. को कब-कब अनियमितताओं एवं भ्रष्टाचार की शिकायतें किस-किस अधिकारी के विरूद्ध की गई? दिनांकवार बतायें। (घ) उपरोक्त अवधि में डॉ. बी.एम. बौहरे द्वारा की शिकायतों की जाँच कब-कब, किस-किस अधिकारी द्वारा कराई गई, प्रत्येक जाँच का प्रतिवेदन दें?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) शासकीय आयुर्वेद महाविद्यालय, ग्वालियर में पदस्थ शिक्षक संवर्ग के तीन सदस्यीय समिति से जाँच कराई गई। जाँच प्रतिवेदन पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। जाँच प्रतिवेदन के आधार पर डॉ. इन्द्रा शाक्य, जिला आयुष अधिकारी, ग्वालियर को आरोप पत्र जारी। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं। (ग) एवं (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार।
स्कूलों का उन्नयन
[स्कूल शिक्षा]
52. ( क्र. 1424 ) श्री हरवंश राठौर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) हाईस्कूल से हायर सेकेण्डरी, माध्यमिक शाला से हाईस्कूल एवं प्राथमिक शाला से माध्यमिक शाला के उन्नयन में नवीन भवन के निर्माण हेतु क्या प्रक्रिया है तथा बण्डा विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत उन्नयन की गई शालाओं में कब तक भवन निर्माण किया जा सकेगा। (ख) बण्डा विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत विगत दो वर्षों में उन्नयित की गई शालाओं की सूची उपलब्ध कराई जाए। (ग) हाईस्कूल से हायर सेकेण्डरी में उन्नयन हेतु यदि छात्र/छात्राओं की संख्या पर्याप्त है दूरी भी 10 किलोमीटर है तो क्या ऐसे हाईस्कूलों को हायर सेकेण्डरी में उन्नयन नहीं किया जा सकता? यदि नहीं, तो विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत हाईस्कूल सेसईसाजी, कंदवा, बहरोल, गूगराखुर्द, बीला, नीमोन स्कूलों का उन्नयन क्यों नहीं किया गया?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) शासकीय प्राथमिक शाला से माध्यमिक शाला में उन्नत शालाओं के नवीन भवन निर्माण हेतु प्रस्ताव जिले की वार्षिक कार्ययोजना में शामिल कर स्वीकृति हेतु भारत शासन को प्रेषित किया जाता है। भारत शासन से स्वीकृति प्राप्त होने पर निर्माण किया जा सकता है। शासकीय माध्यमिक शाला से हाईस्कूल एवं हाईस्कूल से हायर सेकेण्डरी शाला में उन्नत शालाओं के नवीन भवन निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। समय-सीमा बताना संभव नहीं है। (ख) बण्डा विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत विगत दो वर्षों में किसी भी शासकीय प्राथमिक शाला का माध्यमिक शाला में उन्नयन नहीं किया गया है। हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी शालाओं में उन्नत शालाओं की जानकारी संलग्न परिशिष्ट पर है। (ग) शालाओं का उन्नयन मापदण्डों की पूर्ति एवं बजट प्रावधान पर निर्भर करता है। सीमित वित्तीय संसाधन के कारण सभी पात्र शालाओं का उन्नयन संभव नहीं हो पाता है।
छात्र-छात्राओं को साइकिल का वितरण
[स्कूल शिक्षा]
53. ( क्र. 1428 ) श्री हरवंश राठौर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बण्डा विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत ऐसे कितने छात्र-छात्राएं हैं जो राजस्व ग्राम के अतिरिक्त मजरा/टोला से लगभग 1 किलोमीटर या इससे अधिक दूरी से चलकर विद्यालय आते हैं। क्या इन्हें नियमानुसार शत्-प्रतिशत साइकिल वितरण कार्य हो चुका है यदि नहीं, तो क्या कारण है। (ख) क्या जिस पोर्टल से छात्राओं की विद्यालय से उनके निवास स्थल की दूरी का आंकलन कर साइकिल वितरण कार्य कराया जा रहा है। उस पोर्टल में केवल राजस्व ग्राम ही सम्मिलित हैं और मजरा/टोलों का वर्णन न होने के कारण मजरा/टोलों के छात्र-छात्राओं को साइकिल वितरण नहीं हो पाई है तो ऐसे छात्र-छात्राओं को कैसे साइकिल उपलब्ध होगी। क्या इन्हें शासन द्वारा लाभ से वंचित रखा जाएगा। (ग) छात्र-छात्राओं की साइकिलों के क्षतिग्रस्त होने/चोरी होने पर पुन: साइकिल वितरण का प्रावधान है या नहीं जानकारी उपलब्ध कराई जाए।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) बण्डा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत कक्षा 6 वी के 252 एवं कक्षा 9 वीं के 288 छात्र-है जो राजस्व ग्राम के अतिरिक्त मजरा टोला से लगभग 1 किलोमीटर से अधिक दूरी से चलकर विद्यालय आते है। जी नहीं। निशुल्क सायकिल प्रदाय योजना अन्तर्गत मजरे/ टोले एवं दूरी का नियम नहीं है, अपितु छात्र के ग्राम में माध्यमिक/हाई स्कूल की सुविधा न होने पर अन्य ग्राम के शासकीय स्कूल में शिक्षा ग्रहण करने हेतु सायकिल दिये जाने का नियम है। (ख) नि:शुल्क सायकिल वितरण हेतु निर्धारित मापदण्ड पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। इस प्रावधान के अनुसार पोर्टल पर व्यवस्था की गई है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) साइकिलों के क्षतिग्रस्त /चोरी होने पर पुन: सायकिल प्रदाय करने का प्रावधान नहीं है। प्रदायित सायकिलों की वारंटी एक वर्ष के लिए निर्धारित है।
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों में डॉक्टरों की पदस्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
54. ( क्र. 1569 ) डॉ. कैलाश जाटव : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र गोटेगांव में स्थित एकमात्र सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र गोटेगांव में डॉक्टर के कितने पद स्वीकृत हैं स्वीकृत पदों के विरूद्ध कितने पद भरे हुए हैं। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार यदि रिक्त पद हैं तो रिक्त पदों के विरूद्ध पदपूर्ति किये जाने हेतु शासन की ओर से क्या कार्यवाही की गई?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) विधानसभा क्षेत्र गोटेगांव में स्थिति सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, गोटेगांव में विशेषज्ञों के 03 तथा चिकित्सा अधिकारी के 02 पद स्वीकृत एवं 03 चिकित्सा अधिकारी कार्यरत हैं, विशेषज्ञों के पद रिक्त हैं। (ख) गोटेगांव में विशेषज्ञों के 03 पद रिक्त हैं, प्रदेश में विशेषज्ञों की अत्यधिक कमी है स्वीकृत 3273 पदों के विरूद्ध मात्र 1126 विशेषज्ञ हैं, अतः सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र स्तर की संस्थाओं में पदपूर्ति में कठिनाई हो रही है।
जनशिक्षकों की काउंसलिंग
[स्कूल शिक्षा]
55. ( क्र. 1570 ) डॉ. कैलाश जाटव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विभाग के अंतर्गत बी.ए.सी /जनशिक्षकों को प्रतिनियुक्ति की जाती है? यदि हाँ, तो यह कितने वर्षों के लिए होती है? जिला नरसिंहपुर में बी.ए.सी /जनशिक्षकों की नियुक्ति अंतिम बार कब की गई थी एवं यह नियुक्ति कितने वर्षों के लिए की गई थी? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार यदि बी.ए.सी /जनशिक्षकों की प्रतिनियुक्ति समयावधि खत्म हो चुकी है तो मध्यप्रदेश के कितने जिलों में नवीन प्रतिनियुक्ति की काउंसलिंग की प्रक्रिया पूर्ण की जा चुकी है? सूची उपलब्ध करावें। (ग) यदि अन्य जिलों में प्रक्रिया पूर्ण की जा चुकी हैं तो यह प्रक्रिया नरसिंहपुर में क्यों नहीं की गई? अन्य जिलों की अपेक्षा नरसिंहपुर जिले के बी.ए.सी/जनशिक्षकों को प्रतिनियुक्ति समयावधि पूर्ण होने के बाद भी यह अतिरिक्त लाभ क्यों दिया जा रहा है? नवीन प्रतिनियुक्ति नहीं करवाये जाने में किन अधिकारियों का दोष है इन पर शासन द्वारा क्या कार्यवाही की जावेगी। यदि हाँ, तो कब तक एवं प्रतिनियुक्ति कब तक कर दी जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। प्रतिनियुक्ति अवधि 04 वर्ष कि लिए होती है। जिला नरसिंहपुर में जनशिक्षकों की सेवाये प्रतिनियुक्ति पर अंतिम बार वर्ष 2011 में तथा बी.ए.सी. की सेवायें प्रतिनियुक्ति पर अंतिम बार वर्ष 2014 में ली गई थी। प्रतिनियुक्त 04 वर्ष के लिए थी। (ख) राज्य शिक्षा केन्द्र के पत्र क्रमांक/राशिके/नियु0/2015/7812 दिनांक 30.10.2015 के अनुपालन में समस्त जिलों में बी.एस.सी./जनशिक्षकों के पद हेतु काउंसलिंग की कार्यवाही प्रारंभ की गई। माननीय उच्च न्यायालय, जबलपुर माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ इंदौर एवं माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ ग्वालियर में 04 वर्ष पूर्ण करने वाले कतिपय बी.ए.सी./जनशिक्षकों के द्वारा याचिका दायर की गई। माननीय न्यायालय में प्रकरण विचाराधीन होने से कार्यवाही पूर्ण नहीं की जा सकी। (ग) मध्य प्रदेश के जिलों में ‘ख‘ के उत्तर अनुसार स्थिति है। नरसिंहपुर जिले में भी माननीय उच्च न्यायालय जबलपुर में डब्ल्यू.पी. क्रमांक 21777/2015 एवं डब्ल्यू.पी. क्रमांक 221/2016 में क्रमशः दिनांक 18.12.2015 एवं दिनांक 11.01.2016 के द्वारा 04 वर्ष से कार्यरत बी.ए.सी./जनशिक्षकों को नवीन प्रक्रिया में सम्मिलित करने संबंधी अंतरिम निर्णय दिया गया। न्यायलयीन प्रकरण होने के कारण नवीन प्रतिनियुक्ति की कार्यवाही नहीं की जा सकी। अतः प्रकरण माननीय न्यायालय में विचाराधीन होने से शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नागदा में ब्लॉक मेडिकल आफिसर का पद एवं कार्यालय की स्वीकृति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
56. ( क्र. 1583 ) श्री दिलीप सिंह शेखावत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या नागदा नगर उज्जैन जिले का दूसरा सबसे बडा शहर होकर नागदा तहसील में 63 ग्राम पंचायतों के 110 ग्राम सम्मिलित हैं एवं यहां पर शासकीय चिकित्सालय भी वर्षों से संचालित है इसके बाद भी यहां ब्लॉक मेडिकल आफिसर का पद एवं कार्यालय स्वीकृत नहीं है? (ख) क्या इससे बहुत ही छोटा कस्बा उन्हैल में ब्लॉक मेडिकल आफिसर का पद एवं कार्यालय संचालित है। (ग) यदि हाँ, तो नागदा नगर में ब्लॉक मेडिकल आफिसर का पद एवं कार्यालय कब तक स्वीकृत हो जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। ब्लॉक मेडिकल आफिसर का पद एवं कार्यालय नागदा विकासखण्ड की ब्लॉक प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, उन्हैल में है। (ख) जी हाँ। (ग) शहरी क्षेत्र में ब्लॉक मेडिकल आफिसर का पद एवं कार्यालय खोलने का प्रावधान नहीं है।
शासकीय विद्यालयों में शौचालय निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
57. ( क्र. 1584 ) श्री दिलीप सिंह शेखावत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र नागदा-खाचरौद के किन-किन शासकीय प्राथमिक, माध्यमिक एवं हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में शौचालय निर्मित नहीं हैं। (ख) शौचालय विहीन विद्यालयों में शौचालय निर्माण की क्या योजना है? इन विद्यालयों में कब तक शौचालयों का निर्माण करा लिया जावेगा? (ग) जिन विद्यालयों में शौचालय टूटे हैं, वहां कब तक मरम्मत/नये बना दिये जावेंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) 22 हाई स्कूल व हायर सेकेण्डरी स्कूलों में शौचालय निर्मित है। 106 माध्यमिक विद्यालयों में भवन एवं शौचालय उपलब्ध है। 173 प्राथमिक शालाओं में 168 शाला भवन युक्त है। 05 विद्यालय युक्ति-युक्तकरण के तहत खोले गये है, जिनके स्वयं के भवन नहीं है, परन्तु शौचालय उपलब्ध है। (ख) युक्ति-युक्तकरण के तहत खोली गई शालाओं के भवन निर्माण की स्वीकृति के लिये वार्षिक कार्य योजना 2017-18 में प्रस्तावित की गई है। समय-सीमा बताना संभव नहीं है। (ग) विधानसभा क्षेत्र नागदा, खाचरौद के 24 प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों के शौचालयों में सामान्य मरम्मत की आवश्यकता है। वार्षिक कार्य योजना 2017-18 में वार्षिक रख-रखाव की राशि प्राप्त होने पर शौचालयों का मरम्मत कार्य कर लिया जावेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
विभाग अंतर्गत कार्यरत कर्मचारियों को भुगतान
[आदिम जाति कल्याण]
58. ( क्र. 1610 ) श्री मुरलीधर पाटीदार : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग अंतर्गत कलेक्टर दर पर कर्मचारियों को रखे जाने हेतु क्या दिशा निर्देश हैं? (ख) जिला आगर अंतर्गत विगत 03 वर्षों में कितने कर्मचारियों को कलेक्टर दर पर कार्य में लगाया गया है? सूची उपलब्ध करावें। क्या कलेक्टर दर से कार्य हेतु भुगतान करने से पूर्व या कार्य पर रखने से पूर्व जिला कलेक्टर से अनुमोदन या अनुमति प्राप्त की गई थी? यदि हाँ, तो तद्संबंधी दस्तावेजों की सत्यापित प्रति उपलब्ध करावें? (ग) यदि प्रश्नांश (क) एवं (ख) में उल्लेखित प्रावधान अनुसार कार्यवाही न करते हुए कलेक्टर दर से भुगतान किया गया है तो क्या यह अनियमितता नहीं हैं? यदि हाँ, तो दोषियों पर क्या कार्यवाही की जावेगी एवं कब तक?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) अनुसूचित जाति, विभाग के अन्तर्गत कर्मचारियों को कलेक्टर दर पर रखने के निर्देश, पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार हैं। (ख) जिले अंतर्गत विगत 03 वर्षों में 02 कर्मचारियों को कलेक्टर द्वारा कलेक्टर दर पर अनुसूचित जाति अत्याचार निवारण अधिनियम के तहत अनुकम्पा नियुक्ति दी गई:- 1- श्री महेश मालवीय, पिता स्व. श्री जगन्नाथ जाति बलाई निवासी ढोटी तहसील आगर। 2- श्री भरतलाल पुत्र स्व. श्री प्रभुलाल जाति चमार निवासी कंकडेल तहसील बडोद जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ग) जी नहीं। प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र खिलचीपुर का उन्नयन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
59. ( क्र. 1615 ) कुँवर हजारीलाल दांगी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजगढ़ जिले की विकासखण्ड खिलचीपुर में वर्तमान में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र की क्या क्षमता है तथा इसकी स्थापना किस वर्ष में हुई थी तथा तत्समय विकासखण्ड की जनसंख्या कितनी थी? (ख) क्या वर्तमान में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र की स्थापना के समय से विकासखण्ड खिलचीपुर की जनसंख्या बढ़कर तीन गुनी हो चुकी है, लेकिन उक्त सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में सुविधाओं का विस्तार नहीं कराये जाने से क्षेत्र की जनता को समीपस्थ राज्य राजस्थान के झालाबाड़ व कोटा के निजी चिकित्सालयों में उपचार हेतु जाने के लिये विवश होना पड़ता है? यदि हाँ, तो प्रश्न दिनांक तक विभाग द्वारा सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र की क्षमता एवं सुविधाएं तथा स्टॉफ पूर्ति के लिये क्या-क्या प्रयास किये गये? (ग) क्या शासन उक्त सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र का 100 बिस्तरीय सिविल अस्पताल में उन्नयन कर सभी आवश्यक सुविधाएं प्रदान करने की कार्यवाही करेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) वर्तमान में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र खिलचीपुर में 30 बिस्तरों की क्षमता है। इसकी स्थापना वर्ष-1997 में हुई थी। तत्समय विकासखण्ड की जनसंख्या-108363 थी। (ख) जी नहीं, वर्ष 2011 की जनगणना के मान से विकासखण्ड खिलचीपुर की जनसंख्या-163819 है। गंभीर रोगी बेहतर उपचार हेतु समीपस्त राज्य राजस्थान की स्वास्थ्य संस्थाओं में उपचार कराने जाते है। वर्तमान संस्था का पूरा उपयोग नहीं होने से संस्था की और क्षमता बढा़ना उचित नहीं है एवं स्टाफ के रिक्त पदों की पूर्ति की प्रक्रिया निरन्तर जारी है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय स्कूलों में अतिरिक्त कक्षों का निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
60. ( क्र. 1631 ) श्री अंचल सोनकर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जबलपुर जिले अंतर्गत वर्ष 2013-14 से वर्ष 2015-16 तक शासन द्वारा शासकीय हाई स्कूलों में अतिरिक्त कक्ष एवं जर्जर भवनों के सुधार हेतु कितनी-कितनी राशि कब-कब, किस-किस स्कूल को प्रदान की गई वर्षवार, स्कूलवार विवरण देवें। (ख) क्या शिक्षा विभाग द्वारा अतिरिक्त कक्ष एवं सुधार कार्य के नाम पर जारी राशि से न तो अतिरिक्त कक्षों का निर्माण किया गया है न ही जर्जर भवनों का सुधार कार्य किया गया है? बिना निर्माण कार्य किये राशि का बंटवारा कर शासन को क्षति पहुंचाई गई है? यदि कार्य किया गया है तो किस-किस अधिकारी द्वारा कब-कब कार्य का भौतिक सत्यापन किया गया है? नाम एवं सत्यापन तिथि बतावें। क्या शासन इसकी जाँच कराकर दोषियों पर कार्यवाही करेगा? यदि हाँ, तो समय-सीमा बतावें। (ग) प्रश्नांश (क) अवधि में प्रश्नकर्ता के विधान सभा क्षेत्र पूर्व जबलपुर के अंतर्गत संचालित शासकीय शाला भवनों में से कितने शालाओं में अतिरिक्त कक्षों का निर्माण किया गया है? कितनी शालाओं में बाउन्ड्रीवॉल निर्माण के साथ कितनी शालाओं में सुधार कार्य किया गया है? शालावार मय खर्च राशि के बतावें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) एवं (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार।
शासकीय शालाओं के परीक्षा केन्द्रों का निर्धारण
[स्कूल शिक्षा]
61. ( क्र. 1639 ) श्री नीलेश अवस्थी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पाटन विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत कहाँ-कहाँ पर शासकीय हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल संचालित हैं? इन संचालित शालाओं में कहाँ पर किन-किन विषयों की पढ़ाई की जाती है? विषयवार दर्ज छात्र-छात्राओं की संख्या एवं विषय शिक्षकों की संख्या सहित सूची देवें। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित शालायें किन भवनों के कितने कक्षों में संचालित हो रही हैं? शाला भवनों की अद्यतन स्थिति बतलावें। क्या इन शालाओं की कक्षाओं में विद्युत सप्लाई एवं पंखों की व्यवस्था है या नहीं? (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित कौन-कौन सी शालाओं के छात्र-छात्राओं को कक्षा 10वीं एवं 12वीं की बोर्ड परीक्षा देने अपनी मूल शाला से दूर दूसरी शाला में जाना पड़ता है? मूल शाला का नाम, उसके बनाये गये परीक्षा केन्द्र की शाला का नाम, मूल शाला से परीक्षा केन्द्र तक आवागमन की दूरी सहित संपूर्ण सूची देवें। (घ) प्रश्नांश (ग) में उल्लेखित शालाओं के परीक्षा केन्द्र अन्यत्र बनाने के क्या कारण हैं? क्या यह सही है कि दसवीं एवं बारहवीं बोर्ड की परीक्षा केन्द्र मूल शाला से अन्यत्र बनाये जाते हैं, जिससे बच्चों को दूसरे स्कूल ज्यादा दूरी तय कर बच्चों को परीक्षा केन्द्र पर परीक्षा देने जाना पड़ता है? उत्तर यदि हाँ, तो क्या शासन इस नियम में बदलाव कर छात्र-छात्राओं की मूल शाला में ही दूसरी शाला के अध्यापकों की ड्यूटी लगायेगा, जिससे बच्चों को परीक्षा देने दूसरी शाला में दूर न जाना पड़े? यदि हाँ, तो किस प्रकार से कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) पाटन विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत संचालित शासकीय हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-तीन अनुसार है। (घ) दसवीं एवं बारहवीं बोर्ड की परीक्षा केन्द्र मूल शाला से अन्यत्र बनाये है। माध्यमिक शिक्षा मण्डल मध्यप्रदेश, भोपाल के हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी परीक्षा वर्ष 2017 के परीक्षा केन्द्रों के निर्धारण हेतु मार्गदर्शी मापदण्ड पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-चार अनुसार परीक्षा केन्द्र मूल शाला से अन्यत्र बनाये गये है। जिले में परीक्षा केन्द्रों के निर्धारण में इस बात का ध्यान रखा गया है कि छात्र-छात्राओं को आवागमन की सुविधा मिले एवं उनको ज्यादा दूर न जाना पड़े। जी नहीं। नकल रहित परीक्षा सुनिश्चित करने हेतु उपरोक्त व्यवस्था की गई है।
विद्यालयों में शौचालय का निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
62. ( क्र. 1640 ) श्री नीलेश अवस्थी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जबलपुर जिले में संचालित प्राथमिक, माध्यमिक हाई स्कूल एवं हा.से. स्कूलों में से कितने विद्यालयों में अब तक शौचालय का निर्माण नहीं किया गया है? विकास खण्डवार जानकारी दें। (ख) जिले में कितने एवं कौन-कौन से विद्यालय ऐसे हैं, जिनमें बालक एवं बालिकाओं हेतु एक ही शौचालय है? शाला के नाम सहित विकासखण्डवार जानकारी दें। कितनी शालाएं ऐसी हैं जहां शौचालय नाम मात्र के ही निर्मित है, उपयोग लायक नहीं हैं? शौचालय विहीन शालाओं में शौचालयों का निर्माण कब तक कराया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जबलपुर जिले में संचालित समस्त शासकीय हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों में शौचालय विद्यमान है। जबलपुर जिले में संचालित 1603 शासकीय प्राथमिक एवं 652 माध्यमिक समस्त शालाओं में शौचालय का निर्माण किया गया है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) शासकीय हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों में बालक एवं बालिकाओं हेतु पृथक-पृथक शौचालय है। अत: जानकारी निरंक है। जबलपुर जिले में कोई भी ऐसी शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाएं नहीं है, जिनमें बालक एवं बालिकाओं हेतु एक ही शौचालय है। ऐसी 38 प्राथमिक/माध्यमिक शालाएं है, जिनमें शौचालय रख-रखाव के अभाव में मरम्मत योग्य हो गये है। जिन्हें वर्ष 2017-18 में वार्षिक सामान्य रख-रखाव मद में प्राप्त होने वाली राशि से मरम्मत कार्य कराया जा सकेगा। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
ए.एन.एम. के पद पर नियुक्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
63. ( क्र. 1685 ) श्री कैलाश चावला : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर ए.एन.एम. के कितने पद स्वीकृत हैं एवं कितने पद रिक्त हैं? (ख) क्या प्रश्नकर्ता विधायक द्वारा माननीय मुख्यमंत्री जी, स्वास्थ्य मंत्री जी एवं प्रमुख सचिव लोक स्वास्थ्य विभाग भोपाल को दिनांक 31-12-2016 को अशासकीय संस्थाओं से नर्सिंग कोर्स डिप्लोमा प्राप्त छात्राओं को ए.एन.एम. के पद पर नियुक्ति पर विचार किए जाने हेतु पत्र लिखा गया था? (ग) प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित पत्र के क्रम में क्या कार्यवाही की गई है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) प्रदेश के प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों में दिनांक 01.02.2017 की स्थिति में ए.एन.एम. के 938 पद स्वीकृत एवं 200 पद रिक्त है। (ख) प्रश्नकर्ता द्वारा उल्लेखित पत्र आज दिनांक तक विभाग को प्राप्त नहीं हुआ। (ग) पत्र प्राप्त न होने की स्थिति में कार्यवाही किये जाने का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
संविदा शिक्षकों का नियमितीकरण
[स्कूल शिक्षा]
64. ( क्र. 1721 ) श्री भारत सिंह कुशवाह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ग्वालियर जिले में कुल कितने संविदा शिक्षक है? इसमें कितने महिला एवं पुरूष है? (ख) वर्तमान में इनको किस हिसाब से वेतन का भुगतान शासन द्वारा किया जा रहा है? (ग) इनको कब तक नियमित किया जावेगा? क्या इस दिशा में शासन विचार कर रहा है अथवा करेंगा? (घ) संविदा शिक्षकों की क्या स्थानांतरण नीति है? क्या महिला कर्मचारियों को स्थानांतरण में कुछ सुविधायें शासन द्वारा दी गई है? यदि हाँ, तो क्या-क्या विवरण दें? जो संविदा महिला कर्मचारी अविवाहित है एवं अपने गृह जिले से दूर दूसरे जिले में पदस्थ है? उसे गृह जिले में स्थानांतरण की शासन की क्या नीति है क्या शासन इस पर विचार करेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) ग्वालियर जिले में कुल 1154 संविदा शाला शिक्षक है इनमें 973 महिला एवं 181 पुरूष है। (ख) वर्तमान में संविदा शाला शिक्षक श्रेणी-1 को 9000/- संविदा शाला शिक्षक श्रेणी-2 को 7000/- एवं संविदा शाला शिक्षक श्रेणी-3 को 5000/- मासिक पारिश्रमिक का भुगतान किया जा रहा है। (ग) म.प्र. पंचायत अध्यापक संवर्ग (नियोजन एवं सेवा की शर्तें) नियम, 2008 के नियम 5 (2) के अनुसार उपयुक्त पाये जाने पर अध्यापक संवर्ग में नियुक्त करने का प्रावधान पूर्व से है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) संविदा शाला शिक्षक की पदस्थापना संस्था विशेष के लिए होती है इनके स्थानांतरण की कोई नीति नहीं है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
कर्मचारियों के जी.पी.एफ. पार्ट फाईनल की स्वीकृति
[स्कूल शिक्षा]
65. ( क्र. 1737 ) श्रीमती चन्दा सुरेन्द्र सिंह गौर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शिक्षा विभाग के कर्मचारियों के जी.पी.एफ. पार्ट फाईनल स्वीकृत किये जाने हेतु शासन के नियमानुसार जमा किये गये देयक पत्रावली को 07 दिवस में स्वीकृत किया जाता है साथ ही पत्रावली को रोककर नहीं रखने के भी शासन के निर्देश है। (ख) क्या टीकमगढ़ जिले सहित खरगापुर विधान सभा क्षेत्र में जिला शिक्षा अधिकारी इन देयक पत्रावलियों को जानबूझकर रोक लेते हैं। सहायक शिक्षक, व्याख्याता, प्रधान अध्यापकों एवं अन्य कर्मचारियों के जी.पी.एफ. पार्ट फाईनल के कितने प्रकरण हैं, जिनमें देयक संकुल प्राचार्य द्वारा समय पर जमा किया परंतु पत्रावलियों की स्वीकृति समयानुसार नहीं की गई है वर्ष 2013 से प्रश्न दिनांक तक जानकारी से अवगत करायें। (ग) क्या कर्मचारियों की भविष्य निधि की राशि की स्वीकृति समय पर नहीं मिल पाती है, गैर जिला शिक्षा अधिकारी कर्मचारियों को परेशान भी करते है। क्या ऐसे अधिकारियों के विरूद्ध आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय द्वारा गंभीरता पूर्वक जाँच करायेंगे। यदि हाँ, तो कब तक समयावधि बतायें? यदि नहीं, तो क्यों कारण स्पष्ट करें तथा दोषी पाये जाने वाले अधिकारी के विरूद्ध जाँच उपरांत कार्यवाही करेंगे।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) स्कूल शिक्षा विभाग के कर्मचारियों को सामान्य भविष्य निधि से आहरण, म.प्र. शासन, सामान्य प्रशासन विभाग के नियम के अधीन स्वीकृत करने की कार्यवाही की जाती है। (ख) जी नहीं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) कर्मचारियों को भविष्य निधि राशि की स्वीकृति समय-सीमा में ही की जाती है। तत्संबंध में कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
स्टॉफ की पद पूर्ति बाबत्
[स्कूल शिक्षा]
66. ( क्र. 1780 ) श्री राम लल्लू वैश्य : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला सिंगरौली के अंतर्गत सहायक शिक्षक एवं शिक्षकों के पदों पर कितने स्टाफ की कमी है? (ख) इनकी पद पूर्ति कब तक में कर ली जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) 901 सहायक शिक्षक एवं 315 शिक्षकों की कमी है। (ख) स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश दिनांक 28 जनवरी, 1998 के अनुसार दिनांक 01.01.1998 से सहायक शिक्षकों, शिक्षकों एवं व्याख्याताओं के सीधी भरती के पदों पर नियुक्ति में रोक लगाई गई है। रिक्त पदों की पूर्ति संविदा भर्ती प्रक्रिया एवं पदोन्नति के माध्यम से किये जाने का प्रावधान है। सीधी भर्ती अंतर्गत रिक्त पदों की पूर्ति के लिये पात्रता परीक्षा आयोजित करने की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। भर्ती एक सतत् प्रक्रिया है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
अतिथि शिक्षकों का अल्प वेतन
[स्कूल शिक्षा]
67. ( क्र. 1795 ) श्री अनिल फिरोजिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) स्कूल शिक्षा विभाग (जिला उज्जैन) में प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं में कितने पद रिक्त है? विद्यालयवार ब्यौरा देवें? (ख) रिक्त पदों की पूर्ति हेतु किन-किन विद्यालयों में कितने-कितने अतिथि शिक्षक नियुक्ति किये गये? कितने विद्यालय शिक्षक/अतिथि शिक्षक विहीन है? (ग) अतिथि शिक्षकों को कितना मानदेय दिया जा रहा है? क्या उक्त मानदेय पर्याप्त है? (घ) क्या विभाग में 3 से 5 वर्षों से अधिक सेवा देने वाले अतिथि शिक्षकों को नियमित/संविदा नियुक्ति दिये जाने की प्रक्रिया विचाराधीन है? यदि नहीं, तो क्यों? (ड.) क्या तीन वर्षों या उससे अधिक समय से कार्य कर रहे अतिथि शिक्षकों को संविदा शिक्षक भर्ती परीक्षा में बोनस अंक दिये जावेंगे? यदि हाँ, तो कितने? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘एक’ अनुसार है। (ग) अतिथि शिक्षक वर्ग-1 को रू. 180/-, वर्ग-2 को रू. 150/- एवं वर्ग-3 को रू. 100/- प्रति उपस्थिति दिवस दिया जा रहा है। (घ) अतिथि शिक्षकों को संविदा शाला शिक्षक श्रेणी-1, श्रेणी-2 एवं श्रेणी-3 के नियोजन की प्रक्रिया में पी.ई.बी. से पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण करने पर अंकों का अधिभार देने का प्रावधान है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ड.) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘दो’ अनुसार है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
निजी चिकित्सालयों में कार्यरत शासकीय चिकित्सकों पर कार्यवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
68. ( क्र. 1851 ) श्री कुँवरजी कोठार : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला राजगढ़ के विधानसभा क्षेत्र सारंगपुर अंतर्गत किन-किन स्थानों एवं ग्रामों में निजी चिकित्सालय/नर्सिंग होम शासन की अनुमति एवं शर्तों के अधीन कब से संचालित हैं? (ख) संचालित निजी चिकित्सालय/नर्सिंग होम को किन-किन रोगों के उपचार एवं ऑपरेशन की अनुमति प्रदान की गई है? क्या अनुमति अनुसार ही पात्र चिकित्सकों से कार्य कराया जा रहा है? कार्यरत चिकित्सकों के नाम, शैक्षणिक योग्यता एवं कार्यानुभव से अवगत करावें? (ग) क्या निजी चिकित्सालय/नर्सिंग होम में उपचार करने वाले चिकित्सकों में कोई शासकीय पद पर भी है? यदि हाँ, तो क्या शासकीय चिकित्सक निजी चिकित्सालय/नर्सिंग होम में सेवा दे सकते हैं? यदि नहीं, तो क्या नियम विरुद्ध कार्यरत चिकित्सकों पर विभाग कोई कार्यवाही करेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) राजगढ़ जिले के विधानसभा क्षेत्र सारंगपुर अन्तर्गत कोई निजी चिकित्सालय/नर्सिंग होम संचालित नहीं है। (ख) एवं (ग) प्रश्नांश ‘‘क’’ के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पदों की स्वीकृति
[स्कूल शिक्षा]
69. ( क्र. 1854 ) श्री प्रदीप अग्रवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शिक्षा विभाग अंतर्गत आने वाली संस्था डाईट दतिया में किस-किस प्रकार के पद स्वीकृत हैं? इनमें रिक्त पदों पर पदांकन करने के किसे अधिकार हैं? इस संबंध में शासन के क्या दिशा-निर्देश हैं? छायाप्रतियां उपलब्ध करायें। (ख) क्या उक्त संस्था में प्रधान अध्यापकों, शिक्षकों, सहायक शिक्षकों का पदांकन किया जा सकता है? यदि नहीं, तो इस संस्था में इस प्रकार के कर्मचारी कार्यरत हैं या नहीं? यदि हैं तो कब से? इन्हें किनके द्वारा पदांकित किया गया? आदेश की छायाप्रति उपलब्ध करायें? (ग) अनाधिकृत रूप से पदांकित इन कर्मचारियों ने इस संस्था से किस-किस माह की कितनी-कितनी राशि वेतन एवं भत्तों के रूप में प्राप्त की? (घ) अनाधिकृत रूप से पदांकित किये गये प्रधान अध्यापकों, शिक्षकों एवं सहायक शिक्षकों के अनाधिकृत आदेशों को निरस्त कर मूल शाला के लिये कब तक वापिस किया जायेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) म.प्र. शासन, स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश क्रमांक एफ-27/68/2009/बी-2, दिनांक 04.06.2012 द्वारा शिक्षक शिक्षा एवं प्रशिक्षण अकादमिक राजपत्रित संवर्ग अंतर्गत डाईट दतिया में स्वीकृत पदों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। पदांकन के अधिकार म.प्र. शिक्षक शिक्षा एवं प्रशिक्षण अकादमिक (राजपत्रित) सेवा भर्ती एवं सेवा शर्तें नियम, 2011 (26.08.2011) के प्रावधान अनुसार है। नियमों की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ख) जी नहीं। संस्था में इस प्रकार के 07 कर्मचारी कार्यरत है, इनमें 06 कर्मचारियों को जिला शिक्षा अधिकारी दतिया द्वारा पदस्थ किया गया था। 01 कर्मचारी को आयुक्त, राज्य शिक्षा केन्द्र द्वारा तत्समय स्वीकृत पद सरंचना अनुसार पदस्थ किया गया था। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है। (ग) पदांकित कर्मचारियों को प्राप्त वेतन एवं भत्तों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-4 अनुसार है। (घ) पदांकित लोक सेवकों को जिला शिक्षा अधिकारी दतिया द्वारा विभिन्न आदेश दिनांक 14.02.2017 द्वारा शालाओं में पदांकित किया जा चुका है। आदेशों की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-5 अनुसार है।
हाईस्कूल व इंटरकॉलेज के भवनों का निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
70. ( क्र. 1856 ) श्री प्रदीप अग्रवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दतिया जिले के विकासखण्ड सेवढ़ा के ग्राम सिलोरी एवं ग्राम टेडा में हाईस्कूल व इंटरकॉलेज हैं अथवा नहीं? यदि हैं तो कब से संचालित हो रहे हैं? (ख) क्या कंडिका (क) में वर्णित स्कूल भवन पृथक से हैं अथवा अन्य भवनों या स्कूलों में (जैसे प्राथमिक या माध्यमिक) लग रहे हैं? यदि अन्य भवनों या स्कूलों में लग रहे हैं, तो क्या कारण है कि इतने वर्षों के बावजूद उक्त हाईस्कूल या इंटर कॉलेज के अपने भवन नहीं बने? (ग) क्या उक्त हाईस्कूल/इंटर कॉलेज अन्य संस्थाओं के साथ लगने तथा छात्र संख्या अधिक होने की वजह से इनमें अध्ययनरत छात्र-छात्राओं को अध्ययन में व्यवधान हो रहा है? परिणामस्वरूप इनके परीक्षा परिणाम प्रभावित हो रहे है? (घ) उक्त दोनों भवनों का निर्माण कार्य कब तक पूर्ण कर लिया जायेगा ताकि बच्चों को अध्ययन में सहायता मिल सके, उनका भविष्य उज्जवल हो सके?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) ग्राम सिलोरी में हाईस्कूल वर्ष 2008 व हायर सेकेण्डरी स्कूल वर्ष 2011 से एवं ग्राम टेडा में हाईस्कूल वर्ष 2008 से संचालित है। (ख) शासकीय हाईस्कूल टेडा एवं उ.मा.वि. सिलोरी शासकीय माध्यमिक विद्यालय के शाला भवनों में संचालित है। शाला भवन का निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर है। (ग) अध्यापन का कार्य दो पालियों में संचालित किया जा रहा है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) भवन निर्माण बजट प्रावधान पर निर्भर करता है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
जिला बीमारी सहायता
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
71. ( क्र. 1893 ) श्री संजय शर्मा : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला बीमारी/राज्य बीमारी सहायता हेतु सिर्फ बी.पी.एल. परिवार को ही पात्रता है? (ख) यदि हाँ, तो परिवार में पिता, माता, पुत्र एवं पुत्री को ही इसका लाभ क्यो दिया जाता है? पुत्रवधु को क्यों नहीं? (ग) जब सम्मलित परिवार है और पुत्र को इस योजना का लाभ दिया जा सकता है तो क्या पुत्रवधु को इस योजना का लाभ नहीं दिया जाना चाहिये? (घ) क्या नियम में संशोधन कर पुत्रवधु को इस योजना में सम्मिलित किया जा सकेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। राज्य बीमारी सहायता निधि योजना हेतु सिर्फ बी.पी.एल. परिवार को ही पात्रता है। (ख) परिवार की परिभाषा में सम्मिलित होने के कारण आश्रित माता, पिता, आश्रित बच्चे (अविवाहित एवं जिनकी आयु 25 वर्ष से कम हो) आश्रित पुत्री को लाभ दिया जाता है। आश्रित पुत्रवधु को भी इसकी पात्रता है। (ग) बी.पी.एल. परिवार की आश्रित पुत्रवधु को राज्य बीमारी सहायता निधि योजना अन्तर्गत पात्रता है। (घ) प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
नियम
विरूद्ध राशि
स्वीकृति पर
कार्यवाही
[विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्धघुमक्कड़ जाति कल्याण]
72. ( क्र. 1993 ) श्री लाखन सिंह यादव : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) शासन द्वारा विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति क्षेत्र के विकास हेतु कौन-कौन सी योजनाएं संचालित हैं वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में प्रश्न दिनांक तक जिला ग्वालियर में किन-किन योजनाओं में कितना-कितना आवंटन प्राप्त हुआ। योजनावार वर्षवार आवंटन की जानकारी देवें। (ख) प्रश्नांश ‘’क’’ अनुसार प्राप्त आवंटन का जिला स्तरीय समिति में कार्य स्वीकृति हेतु कब-कब समिति की बैठक आयोजित की गई? बैठक में जिला ग्वालियर के किन-किन कार्यों को प्रस्तावित किया जाकर जिला स्तर पर एवं शासन स्तर पर स्वीकृत किये गये? कार्य का नाम, राशि का विवरण, ग्राम पंचायतवार जानकारी देवें। (ग) जिला ग्वालियर अंतर्गत ऐसे कितने हितग्राही हैं, जिनको पूर्व में आवास योजना का लाभ मिल चुका था, किन्तु उन्हे सक्षम अधिकारियों द्वारा पुन: योजना का लाभ दिया गया है एवं ऐसी कितनी ग्राम पंचायतें हैं, जिनमें पूर्व से ही अन्य योजनाओं का निर्माण कार्य हो चुका था, उसी स्थान पर पुन: निर्माण कार्य हेतु राशि स्वीकृत की गई? हितग्राही की संख्या ग्रामवार, विकासखण्डवार, कितनी-कितनी राशि स्वीकृत की गई? (घ) प्रश्नांश (ख) अनुसार विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति विकास के स्वीकृत कार्यों का सत्यापन किन-किन जिला स्तरीय अधिकारियों के द्वारा किया गया? कार्यवार सत्यापित करने वाले अधिकारी का नाम एवं दिनांक बताएं। निर्धारित मापदण्ड के विपरीत वास्तविक हितग्राही को लाभ न देते हुये नियम विरूद्ध कार्य करने वाले दोषी अधिकारियों के विरूद्ध विभाग कब तक कार्यवाही करेगा? यदि नहीं, तो क्यो नहीं?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) शासन द्वारा विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जनजाति वर्ग के विकास हेतु निम्नांकित आदि मुख्य योजना संचालित की जा रही हैः-
(1) विमुक्त जाति राज्य छात्रवृत्ति योजना, (2) कन्या साक्षरता प्रोत्साहन योजना (3) विमुक्त जाति छात्रावास योजना (4) विमुक्त जाति आवास योजना उक्त योजना में वर्ष 2014-15 से 2016-17 तक निम्नानुसार राशि उपलब्ध कराई गयी:-
(1) राज्य
छात्रवृत्ति -
स्कूल शिक्षा
विभाग के माध्यम
से संचालित।
(2) कन्या
साक्षरता
प्रोत्साहन
योजना - स्कूल
शिक्षा विभाग
के माध्यम से
संचालित।
(3) विमुक्त
जाति
छात्रावास
योजना - रूपये 93.53 लाख
(4) विमुक्त
जाति आवास
योजना - रूपये 30.00 लाख
(ख) आवास स्वीकृति हेतु दिनांक 16.9.2016 को बैठक आयोजन किया गया एवं अंतिम निर्णय दिनांक 28.11.2016 को लिया गया। जिला स्तर पर स्वीकृत किये गये कार्यों का विवरण निम्नानुसार है :-
जिला स्तर पर स्वीकृत किया गये कार्यों का विवरण
कार्यों का नाम |
राशि का विवरण |
ग्राम पंचायत का नाम |
स्वीकृत
प्रकरण
संख्या |
विमुक्त जाति आवास योजना |
0.60 लाख प्रति हितग्राही |
उठीला |
12 |
टाकोली |
13 |
||
चिरपुरा |
13 |
||
चिटोरा |
12 |
(ग) विभाग द्वारा किसी भी ऐसे हितग्राही को जिन्हें पूर्व में विभाग द्वारा आवास योजना का लाभ दिया जा चुका था, उन्हें पुनः इस योजना का लाभ नहीं दिया गया है। (घ) विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जनजाति विकास के स्वीकृत आवासों को सत्यापन विभागीय उपयंत्री द्वारा किया गया है।
नाम व पद |
निरीक्षण का दिनांक |
श्री डी. व्ही. एस. तोमर (उपयंत्री) |
16.6.2014 |
|
|
14.10.2014 |
|
26.12.2014 |
|
01.06.2015 |
|
23.7.2016 |
निर्धारित
मापदण्ड के
अनुरूप ही
आवास स्वीकृत
किये गये हैं।
शेष प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता।
जिला/राज्य बीमारी सहायता राशि अंतर्गत भुगतान
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
73. ( क्र. 1994 ) श्री लाखन सिंह यादव : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला राज्य बीमारी सहायता निधि के अंतर्गत गरीबी रेखा के मरीजों को मान्यता प्राप्त अस्पतालों में ईलाज कराने पर सहायता राशि का भुगतान संबंधित अस्पताल को किया जाता है? (ख) यदि हाँ, तो ग्वालियर जिले में वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 प्रश्न दिनांक तक कितने ऐसे मरीजों को सहायता राशि भुगतान की गई है? मरीज का नाम, प्रदाय कराई गई राशि एवं किस अस्पताल को राशि प्रदाय कराई गई, संबंधी जानकारी वर्षवार दें। (ग) क्या सहायता राशि के प्रकरण प्राप्त होने से लेकर स्वीकृत करने तक की कोई समय-सीमा निर्धारित है? यदि हाँ, तो आदेश की प्रति दें? (घ) ग्वालियर जिले में ऐसे कितने व्यक्तियों (मरीजों) के प्रकरण लंबित हैं उनकी सूची नाम, पता, अस्पताल एवं इलाज हेतु आवश्यक राशि किन कारणों से स्वीकृत हेतु पेंडिंग रखी गई है प्रत्येक मरीज (प्रकरण) वार अलग-अलग जानकारी उपलब्ध करावें, साथ ही अब उनके इलाज हेतु कब तक सहायता राशि उपलब्ध करा दी जायेगी।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) ग्वालियर जिले में वर्ष 2015-16 में 55 मरीजों एवं 2016-17 में 47 मरीजों को राज्य बीमारी सहायता निधि के अन्तर्गत सहायता राशि स्वीकृत की गई। शेष भाग की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-‘अ’ अनुसार है। (ग) राज्य बीमारी सहायता निधि लोक सेवा गांरटी योजना में सम्मिलित है, जिसमें सहायता राशि स्वीकृत करने हेतु पूर्ण आवेदन प्राप्ति से 10 दिवस की समयावधि निर्धारित है। आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-‘ब’ अनुसार है। (घ) ग्वालियर जिले में राज्य बीमारी सहायता निधि के अन्तर्गत स्वीकृति हेतु प्रकरण लंबित नहीं है।
स्कूल भवनों का निर्माण/मरम्मत
[स्कूल शिक्षा]
74. ( क्र. 2008 ) श्री सचिन यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्तमान में कसरावद विधानसभा क्षेत्र में शासकीय विद्यालयों के जो भवन जर्जर अवस्था में स्थित हैं, के निर्माण कार्य तथा रिपेयरिंग कार्य क्यों नहीं किये जा रहे है, तत्संबंधी ब्यौरा क्या है? (ख) जनवरी, 2014 से प्रनांकित दिनांक तक उक्त भवनों के रिपेयरिंग/निर्माण कार्य हेतु प्रस्ताव शासन एवं विभागीय स्तर पर कब-कब भेजे गए? माह जनवरी, 2017 की स्थिति में कौन-कौन से प्रस्ताव कब-कब स्वीकृत किये गए? कौन-कौन से लंबित है एवं क्यों? भवनवार स्वीकृति की राशि, निर्माण एजेंसी के नाम सहित बतावें? कौन-कौन से रिपेयरिंग/निर्माण कार्य स्वीकृति के पश्चात् अभी तक किस कारण से अप्रारंभ और क्यों है? तत्संबंधी ब्यौरा क्या है? (ग) प्रश्नांकित (ख) की अवधि में प्रश्नकर्ता द्वारा शासन एवं विभागीय स्तर पर स्कूल शिक्षा विभाग को उक्त रिपेयरिंग/निर्माण कार्य हेतु भेजे गये पत्रों पर की गयी कार्यवाही से अवगत न कराये जाने के क्या कारण है? कौन-कौन से प्रस्ताव स्वीकृत हेतु प्रक्रियाधीन है? कौन-कौन से स्वीकृत है? कार्य योजनान्तर्गत कार्यवार नाम सहित बतावें? (घ) उपरोक्त समयावधि के अंतराल में भी उक्त कार्यों को पूर्ण नहीं होने के क्या कारण हैं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) कसरावाद विधानसभा क्षेत्र अन्तर्गत कोई भी शासकीय हाई/हायर सेकेण्डरी विद्यालय का भवन जर्जर अवस्था में नहीं है। शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों के जर्जर भवन तथा रिपेयरिंग कार्य के प्रस्ताव जिले से प्राप्त कर वार्षिक कार्य योजना स्वीकृति हेतु भारत शासन को प्रेषित किये गए है। जिसमें से वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में भारत शासन से प्राप्त स्वीकृति के आधार पर कार्य किये जा रहे है। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-01 अनुसार है। शेष समस्त लंबित प्रस्तावों को वार्षिक कार्य योजना वर्ष 2017-18 में शामिल कर भारत शासन को स्वीकृति हेतु प्रस्तावित किया गया। कार्यों का ब्यौरा की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-02 अनुसार है। (ख) उत्तरांश ‘क’ अनुसार प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों के संबंध में जनवरी 2014 से प्रश्नांकित दिनांक तक के रिपेयरिंग/निर्माण कार्य वर्षवार वार्षिक कार्ययोजना में भेजे गये प्रस्ताव/जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-03 अनुसार है। माह जनवरी, 2017 की स्थिति में उक्त प्रस्तावों में से स्वीकृत किये गये कार्यों की सूची, प्रगति, एजेन्सी का ब्यौरा जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-01 अनुसार है। (ग) विधानसभा क्षेत्र कसरावद अन्तर्गत मान. विधायक महो. द्वारा प्रेषित प्रस्ताव पत्र क्रमांक-66/अ, दिनांक 04.01.2016 के संबंध में प्रस्ताव को वार्षिक कार्य योजना 2016-17 में सम्मिलित किया गया तथा इसकी सूचना मान. विधायक को पत्र क्रमांक-549-550, दि0 10.3.2016 से दी गई है। शेषांश जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-02 अनुसार प्रस्ताव वार्षिक कार्ययोजना वर्ष 2017-18 में स्वीकृत हेतु प्रस्तावित है। स्वीकृत प्रस्ताव एवं कार्यवार विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-01 अनुसार है। (घ) प्रस्तावित कार्यों की भारत शासन से स्वीकृति एवं बजट प्राप्त होने के उपरान्त ही निर्माण कार्य प्रारंभ करने की कार्यवाही की जाती है। वर्तमान में स्वीकृत निर्माण कार्य में से 01 कार्य पूर्ण होकर 02 कार्य की कार्यवाही प्रचलन में है। कार्यवार विस्तृत विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-01 अनुसार है।
आयुष चिकित्सा पद्धति से सस्ती चिकित्सा सुविधा
[आयुष]
75. ( क्र. 2009 ) श्री सचिन यादव : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश में आयुष चिकित्सा प्रणाली बाल कुपोषण का सस्ता निदान, निवारण, उपचार और प्रबंधन उपलब्ध कराती है, यदि हाँ, तो तत्संबंधी ब्यौरा क्या है नहीं तो क्या इस चिकित्सा प्रणाली को शीघ्र लागू किया जायेगा हां, तो कब नहीं तो क्यो? (ख) उक्त चिकित्सा प्रणाली हेतु प्रतिवर्ष कुल कितनी राशि का बजट खर्च किया जाता है और कितना केन्द्र सरकार द्वारा राशि प्राप्त होती है? विगत 5 वर्षों की जानकारी कुल राशिवार एवं वर्षवार दें?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) आयुष रोग नियंत्रण कार्यक्रम के अंतर्गत सम्मिलित व्याधियों में कुपोषण भी है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) आयुष विभाग को बाल कुपोषण हेतु पृथक से कोई राशि प्रदाय नहीं की जाती है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
प्राथमिक एवं माध्यमिक विद्यालयों के भवन निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
76. ( क्र. 2065 ) श्री कुंवर सिंह टेकाम : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सीधी/सिंगरौली जिले के अतंर्गत विधानसभा क्षेत्र धौहनी में कितने प्राथमिक एवं माध्यमिक शालायें संचालित है? सूची उपलब्ध करायें? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में सर्वशिक्षा अभियान के तहत संचालित प्राथमिक, माध्यमिक विद्यालय भवनविहीन है? सूची उपलब्ध करायें? भवन विहीन विद्यालयों के भवन निर्माण हेतु वर्ष 2014-15 एवं 2015-16 में कितने भवनों की स्वीकृति दी गई है एवं निर्माण एजेंसी कौन सी है सूची उपलब्ध करायें? (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में निर्माणाधीन प्राथमिक एवं माध्यमिक विद्यालय की अद्यतन स्थिति क्या है? कितने पूर्ण है एवं कितने अपूर्ण है? अपूर्ण कार्य कब तक पूर्ण करा लिये जावेंगे समय-सीमा बतायें? मजदूरों की मजदूरी भुगतान अभी तक नहीं किया गया है क्यों? मजदूरी भुगतान कब तक कर दिया जावेगा? (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में निर्माण एजेंसी ग्राम पंचायत एवं नगर पंचायत स्तर पर पंचायत राज संचालनालय म.प्र. के पत्र क्रमांक 1381 दिनांक 10.02.2015 के द्वारा एक ही बैंक खाता खोलने का निर्देश जारी किये गये है? यदि हाँ, तो सर्वशिक्षा अभियान के द्वारा 31 विद्यालयों के निर्माण कार्य हेतु पृथक से जिला मुख्यालय में खाता क्यों खुलवाया गया?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) सीधी/सिंगरौली के अंतर्गत विधानसभा क्षेत्र धौहनी में संचालित शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- अ अनुसार है। (ख) सर्व शिक्षा अभियान के तहत संचालित भवन विहीन शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। वर्ष 2014-15 में स्वीकृत 49 प्राथमिक/माध्यमिक शाला भवनों की निर्माण एजेंसी ग्रामीण क्षेत्र में ग्राम पंचायत तथा नगरीय क्षेत्र में नगरीय निकाय है। भवन विहीन शाला एवं उनमें से जिन शालाओं में स्वीकृत शाला भवनों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है। (ग) उत्तरांश (ख) के प्रकाश में सभी 49 निर्माणाधीन शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं के निर्माण कार्य प्रगतिरत है। आगामी शिक्षा सत्र प्रारंभ होने के पूर्व पूर्ण कराया जाना अपेक्षित है। निश्चित समय-सीमा बताना संभव नहीं है। कार्यों का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है। मजदूरों की मजदूरी का भुगतान निर्माण एजेंसी द्वारा किया जाता है। (घ) आयुक्त, राज्य शिक्षा केन्द्र के पत्र क्रमांक राशिके/वित्त/2015/4511 दिनांक 10.6.2015 के परिपालन में पृथक से खाते खोले गये।
प्राथमिक माध्यमिक हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी विद्यालयों का संचालन
[आदिम जाति कल्याण]
77. ( क्र. 2066 ) श्री कुंवर सिंह टेकाम : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सीधी/सिंगरौली जिल में आदिम जाति कल्याण विभाग द्वारा कितने प्राथमिक, माध्यमिक हाईस्कूल, हायर सेकेण्डरी एवं एकलव्य विद्यालय संचालित है? सूची उपलब्ध करायें? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में संचालित प्राथमिक, माध्यमिक, हाई स्कूल, हायर सेकेण्डरी एवं एकलव्य विद्यालयों में पदवार स्वीकृत भरें एवं रिक्त पदों की संख्यावार जानकारी देवें? रिक्त पदों की पूर्ति कब तक कर ली जावेगी? समय-सीमा बतायें? (ग) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में संचालित हाई स्कूल, हायर सेकेण्डरी एवं एकलव्य विद्यालयों में परीक्षा परिणाम वर्ष 2013-14, 2014-15 एवं 2015-16 की जानकारी विद्यालयवार उपलब्ध करायें? कितने छात्र-छात्राएं अध्ययनरत थे? उनमें से उत्तीर्ण एवं अनुत्तीर्ण छात्रों की संख्या विद्यालयवार उपलब्ध करायें? जिन विद्यालयों के परीक्षा परिणाम न्यूनतम रहे हैं उसके लिये जिम्मेदार अधिकारी/कर्मचारियों के विरूद्ध क्या कोई कार्यवाही की गई है? यदि हाँ, तो जानकारी देवें? यदि नहीं, तो क्यों?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) सीधी जिले की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। सिंगरौली जिले में विभागीय एक एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालय संचालित है। (ख) सीधी जिले की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार एवं सिंगरौली जिले की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। पद पूर्ति की निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) सीधी जिले की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' अनुसार है, जिन विद्यालयों के परीक्षा परिणाम न्यून रहे, उन संबंधित संस्था प्रमुखों को कारण बताओ नोटिस जारी किये गये।
आदिवासी विकास विभाग शहडोल में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारियों की पदस्थापना
[आदिम जाति कल्याण]
78. ( क्र. 2077 ) श्रीमती प्रमिला सिंह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शहडोल जिले के अंतर्गत आदिवासी विकास विभाग के छात्रावास/आश्रमों में कितने चतुर्थ कर्मचारी पदस्थ हैं? संस्थावार सूची सहित विवरण दें तथा वर्तमान में वास्तव में जहां उनकी सेवाएं ली जा रही हैं इसकी जानकारी दें। (ख) क्या चर्तुथ श्रेणी कर्मचारियों की ड्यूटी अधिकारी/कर्मचारियों के बंगलों में लगाई जाती है तथा छात्र/छात्राओं से सफाई व खाना बनाने का कार्य कराया जाता है? (ग) क्या आदिवासी विकास विभाग द्वारा यह सुनिश्चित किया जावेगा कि जिस छात्रावास/आश्रम/विद्यालय के लिये नियुक्त है वास्तव में वहीं कार्य करें, ताकि विद्यार्थी विद्याध्ययन में समुचित ध्यान दे सकें। (घ) प्रश्नांश (ग) यदि हाँ, तो कब तक तथा नहीं तो क्यों?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) शहडोल जिले के अंतर्गत आदिवासी विकास विभाग के छात्रावास/आश्रमों में पदस्थ चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। (ग) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्कूलों का उन्नयन
[स्कूल शिक्षा]
79. ( क्र. 2089 ) श्री
शैलेन्द्र
पटेल : क्या
स्कूल शिक्षा
मंत्री महोदय
यह बताने की कृपा
करेंगे कि (क) राईट
टू एजुकेशन
(आर.टी.आई.) के
तहत स्कूल
खोले जाने के
क्या नियम है? आर.टी.आई.
के तहत हाई स्कूल
में हायर
सेकेण्डरी
स्कूल में
उन्नयन किये
जाने के क्या
नियम है?
(ख)
यदि
कोई ग्राम
जनसंख्या के
नियमों को
पूर्ण नहीं
करता लेकिन
छात्र संख्या
एवं हायर
सेकेण्डरी
स्कूल से
दूरी के
नियमों को
पूर्ण करता है, तो क्या
वहाँ स्कूल
खोला जाएगा? यदि नहीं, तो ग्राम
के छात्रों के
भविष्य को
लेकर शासन के
पास क्या
योजना है? (ग) स्कूल
से दूरी अधिक
होने के कारण
क्या
छात्रों को स्कूल
पहुंचाने
हेतु शासन
द्वारा क्या
व्यवस्था
एवं नियम है? यदि नहीं, तो यह
छात्र स्कूल
कैसे
पहुंचेंगे? (घ) सीहोर
जिलांतर्गत
इछावर
विधानसभा
क्षेत्र के
ग्राम मुसकरा
का हाई स्कूल
हायर सेकेण्डरी
में उन्नयन के
क्या-क्या
नियम पूर्ण
करता है?
इस
स्कूल का उन्नयन
कब तक कर दिया
जावेगा।
स्कूल
शिक्षा
मंत्री (
कुँवर विजय
शाह ) : (क) शासकीय
प्राथमिक
विद्यालय से
माध्यमिक विद्यालय
के संबंध में
उन्नयन हेतु
निःशुल्क और अनिवार्य
बाल शिक्षा
अधिकार
अधिनियम 2009 अंतर्गत
निःशुल्क और
अनिवार्य बाल
शिक्षा
अधिकार नियम 26 मार्च 2011 की धारा-4 में
पड़ोस के तहत-‘‘ (1) क्षेत्र
या पड़ोस की
सीमाएं जिनके
भीतर राज्य
सरकार द्वारा
स्कूल
स्थापित किया
जाना है नियम 2 के
उपनियम (1)
के
खण्ड (ट) में
यथा परिभाषित
क्षेत्र या
सीमा होगी
परंतु यदि क्षेत्र
के भीतर किसी
बसाहट या
पड़ोस की सीमा
में एक किमी.
की परिधि के
भीतर
प्रायमरी
स्कूल की
सुविधा नहीं
है और 6 से 11 वर्ष की
आयु के कम से
कम 40
बच्चें
उपलब्ध है तो
राज्य सरकार
ऐसी बसाहट में
प्रायमरी
स्कूल की
सुविधा उपबंध
करेगी परंतु
यह और कि यदि
क्षेत्र के
भीतर बसाहट या
पड़ोस की सीमा
के भीतर तीन
कि.मी. की
परिधि में कोई
मिडिल स्कूल
की सुविधा उपलब्ध
नहीं है और 11 से 14
वर्ष की आयु
के कम से कम 12 बच्चें
उपलब्ध है, तो राज्य
सरकार ऐसी
बसाहट में
मिडिल स्कूल
की सुविधा
उपबंध करेगी। ‘‘ शासकीय
माध्यमिक
विद्यालय से हाईस्कूल, हाईस्कूल
से हायर
सेकेण्डरी
स्कूल उन्नयन
हेतु
निर्धारित
मापदण्ड संलग्न
परिशिष्ट पर
है। (ख) शालाओं
का उन्नयन बजट
की उपलब्धता
एवं निर्धारित
मापदण्ड की
पूर्ति पर
निर्भर करता
है। शेषांश का
प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता। (ग) कक्षा
6वीं एवं 9वीं हेतु
छात्रों के
ग्राम में
मिडिल/हाईस्कूल
की सुविधा उपलब्ध
न होने की
स्थिति में
अन्य ग्राम
में शिक्षा
प्राप्त करने
हेतु साइकिल
प्रदाय की
जाती है।
शेषांश का
प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता। (घ) शासकीय
हाईस्कूल
मुसकरा दूरी
एवं छात्र संख्या
के नियम पूर्ण
करता है,
किन्तु
ग्राम की
जनसंख्या के
मापदण्ड की
पूर्ति नहीं
करता है। शाला
का उन्नयन बजट
प्रावधान एवं
मापदण्डों की
पूर्ति पर
निर्भर करता
है। समय-सीमा
बताया जाना
संभव नहीं है।
अस्पतालों में सुरक्षा व साफ-सफाई
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
80. ( क्र. 2090 ) श्री शैलेन्द्र पटेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासन द्वारा शासकीय अस्पतालों में सुरक्षा व्यवस्था एवं साफ-सफाई कर्मियों को रखने के संबंध में क्या नियम है? क्या प्राथमिक सिविल अस्पतालों में भिन्न-भिन्न नियम अमल में लाए जाते है? (ख) क्या अस्पतालों में ओ.पी.डी के दवाब के आधार पर सुरक्षा व सफाई व्यवस्था प्रदान की जाती है यदि हाँ, तो क्या नियम है? (ग) इछावर, बुदनी, आष्टा और सीहोर तहसील के किन-किन अस्पतालों में प्रतिमाह ओ.पी.डी रोगियों तथा दाखिल हुए रोगियों की संख्या कितनी-कितनी रही एक वर्ष की जानकारी उपलब्ध कराएं? अस्पतालवार माहवार जिले की प्रत्येक शासकीय अस्पताल की ओ.पी.डी./आई.पी.डी. एवं प्रसव संख्या का ब्यौरा दें?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) सुरक्षा एवं साफ-सफाई व्यवस्था आउट सोर्स एजेन्सी के माध्यम से किया जाने का नियम है। जी नहीं, अस्पताल के प्रकार एवं बिस्तर संख्या के अनुरूप मापदण्ड निर्धारित है। मापदण्ड की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘’अ’’ अनुसार है। (ख) जी नहीं, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’ब’’ अनुसार है।
सर्वशिक्षा अभियान के तहत स्वीकृत भवन
[स्कूल शिक्षा]
81. ( क्र. 2132 ) श्री शान्तिलाल बिलवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) झाबुआ जिले में वर्ष 2013-14, 2014-15 एवं 2015-16 तक सर्व शिक्षा अभियान के तहत कितने माध्यमिक शाला भवन, प्राथमिक शाला भवन तथा अतिरिक्त कक्ष, बाउण्ड्रीवॉल निर्माण के कार्य स्वीकृत किये गये वर्षवार पृथक-पृथक सूची भी दें? (ख) स्वीकृत शाला भवनों व अतिरिक्त कक्षों में से कितने भवन पूर्ण हुए तथा कितने अपूर्ण है? अपूर्ण भवनों की सूची भी देवें। (ग) शाला भवनों/ अतिरिक्त कक्षों के अपूर्ण रहने के क्या कारण है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) झाबुआ जिले में वर्ष 2013-14 एवं 2015-16 में निरंक माध्यमिक शाला भवन, प्राथमिक शाला तथा अतिरिक्त कक्ष, बाउण्ड्रीवॉल निर्माण कार्य स्वीकृत किये गये। वर्ष 2014-15 में 12 प्राथमिक एवं 07 माध्यमिक शाला भवन स्वीकृत किये गये। सूची संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) सभी कार्य अपूर्ण है। अपूर्ण कार्यों की सूची संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र- ''ब'' अनुसार है। (ग) 11 प्राथमिक एवं 07 माध्यमिक शाला भवन निर्माणाधीन होकर प्रगतिरत है। 01 प्राथमिक शाला भवन का निर्माण भूमि विवाद की स्थिति होने से प्रारंभ नहीं हो सका है।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत कार्यरत संविदा कर्मचारियों को नियमितीकरण
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
82. ( क्र. 2134 ) श्री शान्तिलाल बिलवाल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) झाबुआ जिले में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत वर्तमान में कुल कितने कर्मचारी संविदा पर कार्यरत है? (ख) राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के संविदा कर्मचारी जो डिग्री प्राप्त है, उन्हें नियमित किये जाने हेतु शासन की कोई योजना है? यदि हाँ, तो विवरण देवें? (ग) स्कूल शिक्षा विभाग की भांति इन संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों को भी 3 वर्ष बाद नियमित या समायोजित करने की शासन की कोई नीति अपनाई जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) कुल 261 कर्मचारी संविदा पर कार्यरत है। (ख) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं।
सामुदायिक वन अधिकार दिया जाना
[आदिम जाति कल्याण]
83. ( क्र. 2161 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या हरदा जिले में वन विभाग द्वारा भा.व.अ. 1927 की धारा 4 में अधिसूचित भूमियों पर राजस्व अभिलेख निस्तार पत्रक, अधिकार अभिलेख में दर्ज अधिकार एवं प्रयोजनों के जनवरी 2008 से लागू वन अधिकार कानून 2006 की धारा 3 (1) ख के अनुसार प्रश्नांकित दिनांक तक भी सामुदायिक वन अधिकार पत्र वितरित नहीं किये गये? (ख) धारा 3 (1) ख में क्या प्रावधान दिया है, प्रमुख सचिव, आदिम जाति कल्याण विभाग ने 10 जून 2008 एवं प्रमुख सचिव वन ने 10 अप्रैल 2015 को क्या-क्या आदेश एवं निर्देश कलेक्टर को दिये हैं? (ग) हरदा जिले के निस्तार पत्रक एवं अधिकार अभिलेखों में किन-किन अधिकारों एवं किन-किन प्रयोजनों के लिये दर्ज कितनी जमीनों को वन विभाग ने धारा 4 में अधिसूचित कर वर्किंग प्लान में शामिल कर लिया है? (घ) धारा 4 में अधिसूचित भूमियों पर निस्तार पत्रक एवं अधिकार अभिलेख में दर्ज अधिकारों एवं प्रयोजनों के सामुदायिक वन अधिकार पत्र कब तक वितरित कर दिये जायेंगे?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी नहीं, हरदा जिले में वन अधिकार अधिनियम 2006 की धारा 2 (घ) में परिभाषित ’’वनभूमि’’ पर अधिनियम की धारा 3 (1) ख के अनुसार के परम्परागत रूप से सामुदायिक उपयोग के 166 सामुदायिक हक प्रमाण पत्र वितरित किये गये है। (ख) वन अधिकार अधिनियम 2006 की धारा 3 (1) ख में प्रावधान पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''एक'' अनुसार है, तथा प्रमुख सचिव आदिम जाति कल्याण विभाग एवं वन विभाग द्वारा जारी निर्देश पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''दो'' अनुसार है। (ग) हरदा जिले में भारतीय वन अधिनियम 1927 की धारा 4 (1) के अंतर्गत 31146 हेक्टेयर भूमि अधिसूचित की जाकर कार्य-आयोजना में सम्मिलित की गई है। धारा 4 (1) की अधिसूचना हेतु भूमि के मद/प्रयोजन की जानकारी की आवश्यकता नहीं होती है। (घ) उत्तरांश ’’क’’ के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अध्यापक संवर्ग को छठा वेतनमान
[स्कूल शिक्षा]
84. ( क्र. 2204 ) श्री गिरीश भंडारी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश के अध्यापक संवर्ग को शासन द्वारा किस दिनांक से छठा वेतनमान दिया जाना स्वीकृत किया गया है? आदेश की प्रति उपलब्ध करावें। क्या शासन के आदेशानुसार प्रदेश के पूरे जिले, ब्लॉक व संकुल केन्द्रों पर एकसमान वेतन निर्धारण किया गया है? (ख) प्रश्न की कंडिका (क) की उपलब्ध जानकारी अनुसार प्रदेश में सभी जगह एक समान वेतनमान नहीं दिया जा रहा है तो क्या कारण हैं? यदि आदेश त्रुटिपूर्ण है या विसंगतिपूर्ण है तो विसंगति रहित आदेश शासन कब तक जारी करेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) म.प्र. शासन, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के आदेश दिनांक 15 अक्टूबर 2016 के अनुसार दिनांक 01.01.2016 से अध्यापक संवर्ग को छठवें वेतनमान का लाभ प्रदेश में दिया गया है। आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। संदर्भित आदेश में निहित निर्देशों के अनुक्रम में वेतन निर्धारण की कार्यवाही प्रचलित है। (ख) संवर्ग में वरिष्ठता निर्धारण, सेवावधि की गणना, वेतन वृद्धि की गणना में विसंगति/त्रुटि के कारण अंतर की स्थिति निर्मित हुई है। इसके समाधान के लिये उदाहरण सहित स्पष्टिकरण जारी करने की कार्यवाही प्रचलित हैं।
बजट का आवंटन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
85. ( क्र. 2205 ) श्री गिरीश भंडारी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के अता. प्रश्न क्र. 1663 दिनांक 09/12/2016 की कंडिका (ग) में शासन ने कुछ देनदारियां शेष मानी थी। क्या प्रश्न दिनांक तक उक्त देनदारियों का भुगतान कर दिया गया है? यदि हाँ, तो कब तक? (ख) यदि नहीं, है तो उक्त भुगतान कब तक कर दिया जायेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। जाँच उपरांत सी.एम.एच.ओ., राजगढ़ को साफ-सफाई मद में आवंटन जारी कर दिया गया है। (ख) प्रश्नांश ’’क’’ के अनुक्रम में प्रश्न उत्पन्न नहीं होता है।
सागर जिला अंतर्गत शिक्षकों को समयमान-वेतनमान
[स्कूल शिक्षा]
86. ( क्र. 2225 ) श्री शैलेन्द्र जैन : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शिक्षकों को प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय समयमान-वेतनमान देने का प्रावधान है? यदि हाँ, तो किस संवर्ग के शिक्षकों को समयमान-वेतनमान का प्रावधान कितने वर्षों की सेवा पर देने का प्रावधान है? (ख) सागर विधानसभा क्षेत्र में कितने शिक्षक पदस्थ/कार्यरत हैं? कितनों को प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय समयमान-वेतनमान दिया गया है? कितने शेष हैं? कितनों को किस कारण पात्रता नहीं है बतायें। (ग) प्रश्नांश (क) संदर्भित कितने शिक्षकों को प्रथम समयमान मिलने के बाद द्वितीय नहीं दिया गया है? जबकि उन्हें द्वितीय समयमान-वेतनमान मिल जाना था? संख्या संवर्गवार बतायें। (घ) जून 2016 तक प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय समयमान-वेतनमान की पात्रताधारी शिक्षकों को कब तक प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय समयमान-वेतनमान स्वीकृत कर राशि भुगतान कर दी जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) 115 उ.श्रे.शिक्षक/प्रधानाध्यापक माध्यमिक शाला एवं 210 सहायक शिक्षक/ प्रधानाध्यापक प्राथमिक शाला पदस्थ/कार्यरत है। प्रश्नांश ''क'' के उत्तर के प्रकाश में शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) एवं (घ) प्रश्नांश ''क'' उत्तर के प्रकाश में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है।
कुष्ठ कर्मचारियों/एन.एम.एस. एवं एन.एम.ए. को समयमान वेतन का लाभ
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
87. ( क्र. 2243 ) श्रीमती ऊषा चौधरी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वित्त विभाग के पत्र क्र.एफ.11-17/2014/नियम/चार भोपाल 30 सितम्बर 2014 एवं वित्त विभाग के ही पत्र क्र.एफ.-11/01/2016/चार भोपाल दिनांक 04 अप्रैल 2016 के द्वारा सभी शासकीय कर्मचारियों को 30 वर्ष की सेवा उपरांत समयमान वेतन (time scale pay) दिए जाने के निर्देश जारी किये गए थे? (ख) यदि हाँ, तो स्वास्थ्य विभाग के कुष्ठ कर्मचारियों, एन.एम.एस. एवं एन.एम.ए. को आज दिनांक तक समयमान वेतन का लाभ क्यों नहीं दिया गया कारण सहित बताएँ? (ग) क्या इस संबंध में सचिव स्वास्थ्य द्वारा 08/09/2016 को आयुक्त स्वास्थ्य और एफ.ए. को परीक्षण (examine) कर प्रस्तावित करने हेतु लिखा गया, यदि हाँ, तो उसके बाद भी आज दिनांक तक पदनाम के अनुसार आदेश जारी क्यों नहीं किए गए? (घ) उपरोक्त आदेश के परिपालन में विभाग द्वारा कब तक आदेश जारी कर दिए जावेंगे निश्चित समय-सीमा बताएं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) नियमानुसार समयमान वेतनमान का लाभ सीधी भर्ती पर नियुक्त कर्मचारियों को दिये जाने का प्रावधान है। विभागीय भर्ती नियम 1989 में एन.एम.एस. एवं एन.एम.ए. का पद 100 प्रतिशत पदोन्नति का होने से इस संवर्ग को समयमान वेतनमान का लाभ देने में कठिनाई है। (ग) जी हाँ। सीधी भर्ती पर नियुक्त कर्मचारियों को समयमान वेतनमान दिये जाने हेतु प्रस्ताव प्रशासकीय विभाग के माध्यम से वित्त विभाग को प्रेषित किया गया था। प्रस्ताव वित्त विभाग की टीप दिनांक 05.10.2012 द्वारा अमान्य किया गया है। (घ) उत्तरांश (ग) अनुसार।
बस्ती विकास योजनान्तर्गत निर्माण कार्य!
[अनुसूचित जाति कल्याण]
88. ( क्र. 2266 ) श्री मानवेन्द्र सिंह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) आदिम जाति कल्याण विभाग द्वारा अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजनांतर्गत कौन-कौन से कार्य किये जाने के प्रावधान होकर कितनी राशि वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में जिला छतरपुर को प्राप्त हुई है? (ख) प्रश्नांश ''क'' में उल्लेखित संदर्भ में जनपद पंचायत नौगांव, लवकुशनगर, गौरिहार व राजनगर जिला छतरपुर में कितनी राशि आवंटित की गई? (ग) प्रश्नांश ''ख'' में प्राप्त राशि में से जनपद पंचायत नौगांव, राजनगर, लवकुशनगर, गौरिहार में किन-किन निर्माण कार्यों के लिये कितनी कितनी राशि दी जाकर क्या-क्या कार्य किये गये की जानकारी निर्माण कार्य का नाम, पता, स्वीकृत राशि, पूर्ण/अपूर्ण, प्रदाय राशि आदि सहित जानकारी दी जावे। क्या उल्लेखित वित्तीय वर्ष में ग्राम पंचायत धबारी को रूपये 16.50 लाख, उदयपुर को रू. 27.11 लाख, जैवराहा को रू. 27.50 लाख, बसारी को रू. 39.00 लाख तथा देवपुर को रू.18.00 लाख की प्रशासकीय स्वीकृति जारी हुई है क्या यह नियमानुसार है? यदि नहीं, तो क्या सक्षम अधिकारी के विरूद्ध निलंबन की कार्यवाही करेंगे? यदि हाँ, तो कब तक? (घ) क्या कुछ कार्यों में कार्य पूर्ण होने के उपरांत भी शेष राशि नहीं दी गई है? कारण बताएं?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) प्रावधान की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। छतरपुर जिले को वर्ष 2014-15 में 159.98 लाख, 2015-16 में 166.48 लाख एवं वर्ष 2016-17 में 263.40 लाख की राशि प्राप्त हुई। (ख) जनपद पंचायत नौगांव, लवकुशनगर, गौरीहार व राजनगर को आवंटित राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘स’ अनुसार है। ग्राम पंचायत धबारी को रू. 17.50 लाख, ग्राम पंचायत जैवराहा को रू. 25.00 लाख की प्रशासकीय स्वीकृति जारी की गयी है। ग्राम पंचायत बसारी, देवपुर एवं उदयपुर को कोई कार्य प्रश्नाधीन अवधि में स्वीकृत नहीं किया गया है। उक्त प्रशासकीय स्वीकृतियां नियमानुसार जारी की गयी हैं। शेष कार्यवाही का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी हाँ। त्रैमासवार आवंटन प्राप्त होने के कारण।
अपूर्ण भवन का निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
89. ( क्र. 2267 ) श्री मानवेन्द्र सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छतरपुर जिले के महाराजपुर में कस्तूरबा गांधी बालिका छात्रावास का भवन राज्य शासन द्वारा कब स्वीकृत हुआ इसकी लागत क्या है? निर्माण एजेंसी कौन है? कार्य पूर्ण की अवधि क्या है? (ख) निर्माण एजेंसी द्वारा कितनी राशि प्राप्त की है? क्या उक्त भवन का कितनी राशि का भौतिक सत्यापन किया गया है? क्या उक्त भवन की राशि प्राप्त हो गई है? अगर पूर्ण राशि प्राप्त हो गई है तो गड़बड़ी करने वाले के खिलाफ अभी तक क्या कार्यवाही की गई? (ग) क्या विभाग के पास उक्त अधूरे कार्यों को पूर्ण कराने की योजना है, ताकि बालिकाओं को उसका लाभ प्राप्त हो सकें। क्या संबंधित निर्माण एजेंसी से प्राप्त राशि की रिकवरी करते हुए ब्लैक लिस्टेड करने की कार्यवाही करेंगे। यदि हाँ, तो कब तक?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) छतरपुर जिले का महाराजपुर में कस्तूरबा गांधी बालिका छात्रावास का भवन वर्ष 2008-09 में स्वीकृत हुआ, इसकी लागत रू. 56.56 लाख, निर्माण कार्य का एजेंसी मध्यप्रदेश गृह निर्माण मण्डल एवं कार्य की पूर्णता अवधि 09 माह थी। (ख) निर्माण एजेंसी को राशि रू. 67.90 लाख जारी की गई। मण्डल द्वारा राशि रू. 73.32681 लाख का उपयोगिता प्रमाण-पत्र प्रेषित किया गया। कार्य की पुनरीक्षित प्रशासकीय स्वीकृति जारी करने की कार्यवाही प्रचलन में है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। निर्माण एजेंसी से रिकवरी एवं ब्लैक लिस्टेड करने की कार्यवही करने हेतु मध्यप्रदेश गृह निर्माण मण्डल को पत्र क्रमांक रा.शि.के./निर्माण/2017/1331 दि. 18.02.2017 द्वारा अवगत कराया गया है। समय-सीमा बतलाना संभव नहीं है।
दिव्यांग बच्चों के प्रति मानवीय दृष्टिकोण अपनाकर साधन उपलब्ध कराना
[स्कूल शिक्षा]
90. ( क्र. 2277 ) श्री सुखेन्द्र सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश सरकार द्वारा रीवा जिले में दिव्यांग विद्यालय की कुल (शासकीय व निजी) 7 संस्थाएं संचालित हैं? यदि हाँ, तो शिक्षा विभाग द्वारा जिले में लगभग 2952 दिव्यांग बच्चों को चिन्हित किया गया है? यदि हाँ, तो इनमें से 2300 बच्चे ऐसे हैं, जिन्हें सामान्य शिक्षकों के भरोसे छोड़ दिया गया है, जो इन बच्चों को पढ़ाने के लिये निर्धारित योग्यता नहीं रखते हैं? (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में केवल 25 प्रशिक्षित शिक्षक उपलब्ध है? क्या केवल प्रशिक्षित शिक्षक शहर में स्थित शासकीय व निजी स्कूलों तक सीमित है? ग्रामीण क्षेत्रों के दिव्यांग बच्चों के लिये केवल वही शिक्षक उपलब्ध है, जिन्हें 10 दिन तक का प्रशिक्षण प्राप्त है? (ग) प्रश्नांश (क) (ख) के प्रकाश में केन्द्र सरकार द्वारा दिव्यांग बच्चों एवं शिक्षकों का अनुपात 12 एवं 1 का होना चाहिए, जबकि दिव्यांग बच्चों की उपस्थित अनुसार प्रशिक्षित शिक्षकों की संख्या 250 के करीब होना चाहिये जो कि 25 है? (घ) प्रश्नांश (ग) के प्रकाश में क्या शासन द्वारा दिव्यांगों के साथ न्याय किया जाकर केन्द्र सरकार के नियम अनुसार प्रशिक्षित शिक्षक उपलब्ध कराएगें? यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा रीवा जिले में दिव्यांग (विशेष आवश्यकता वाले बच्चों) के लिए पृथक से कोई विद्यालय/संस्था संचालित नहीं है। रीवा जिले में स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा 50 विशेष आवश्यकता वाले बच्चों के लिए एक छात्रावास संचालित है जिसके बच्चे सामान्य शाला में पढ़ने जाते है। जिले के अन्य 2586 बच्चे विभाग की अन्य शासकीय विद्यालयों में सामान्य बच्चों के साथ सर्व शिक्षा अभियान की समावेशित शिक्षा अंतर्गत अध्ययनरत है। इन बच्चों को पढ़ने में सहयोग के लिए रीवा जिले में 12 मोबाइल स्त्रोत सलाहकार (विशेष शिक्षा में योग्यताधारी) कार्यरत है, जो कि इन बच्चों को पढाने के लिए निर्धारित योग्यता रखते है। (ख) रीवा जिले के शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्र के दिव्यांग बच्चों के लिए सर्व शिक्षा अभियान की आई.ई.डी. गाइड लाईन अनुसार विकासखण्ड मुख्यालय पर 12 मोबाइल स्त्रोत सलाहकार (विशेष शिक्षा में योग्यताधारी) उपलब्ध है। इनके मार्ग दर्शन में सामान्य विद्यालयों के शिक्षक एवं अभिभावकों के माध्यम से जिले के दिव्यांग बच्चों की शिक्षण व्यवस्था की गई है। (ग) सर्व शिक्षा अभियान की आई.ई.डी. गाइड लाईन में दिव्यांग बच्चों (छात्रों) एवं विशेष शिक्षकों के अनुपात का उल्लेख नहीं है। (घ) उत्तरांश (ग) के प्रकाश में प्रश्न उत्पन्न नहीं होता है।
खाद्य वस्तुओं की जाँच में लापरवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
91. ( क्र. 2331 ) कुँवर
विक्रम सिंह :
क्या लोक
स्वास्थ्य और
परिवार
कल्याण मंत्री
महोदय यह
बताने की कृपा
करेंगे कि (क) खाद्य
सुरक्षा
अधिकारियों
द्वारा खाद्य
सुरक्षा और मानक
अधिनियम 2006 के
अंतर्गत 1.1.2014 से 1.1.2017 तक
मिलावटी
प्रकरणों में
कितनों के
खिलाफ प्रदेश
में
कार्यवाही की
गई? (ख) प्रत्येक
प्रकरण की
जाँच किस
लेबोरेटरी
में की गई तथा
क्या निष्कर्ष
प्राप्त हुए? (ग) छतरपुर
जिले में
खाद्य वस्तुओं
की जाँच हेतु
कौन-कौन
अधिकारी
कार्यरत है? क्या
प्रतिमाह
उनके द्वारा
निरीक्षण
नहीं किया
जाता, जिससे
मिलावट के
कारण लोग
गंभीर बीमारी
का शिकार हो
रहे है? (घ) विभागीय
अधिकारियों
द्वारा विगत
तीन वर्षों
में किन-किन
तिथियों में निरीक्षण
किये गये? उनके
शासन के क्या
निर्देश हैं, विभाग की
गाईड लाईन
उपलब्ध
करावें?
लोक
स्वास्थ्य और
परिवार
कल्याण
मंत्री ( श्री
रुस्तम सिंह ) :
(क) खाद्य
एवं औषधि
प्रशासन जिला
छतरपुर के
खाद्य
सुरक्षा
अधिकारियों
द्वारा खाद्य
सुरक्षा और
मानक अधिनियम 2006 के
अंतर्गत 01.01.2014 से 01.01.2017 तक
जांच उपरांत मिलावटी
पाये गये
प्रकरणों में
संबंधित खाद्य
कारोबारकर्ताओं
के विरूद्ध की
गई कार्यवाही
का विवरण
पुस्तकालय
में रखे
परिशिष्ट के
प्रपत्र ‘1’ अनुसार
है। (ख) खाद्य
पदार्थों की
जाँच राज्य
खाद्य प्रयोगशाला
भोपाल में की
गई। जाँच
उपरांत
प्राप्त निष्कर्षों
का विवरण
पुस्तकालय
में रखे
परिशिष्ट के
प्रपत्र ‘1’ अनुसार
है। (ग) छतरपुर
जिले में
खाद्य एवं
औषधि प्रशासन
अंतर्गत दो
खाद्य
सुरक्षा
अधिकारी 1. श्री
संतोष कु़.
तिवारी एवं 2. श्री
अमित कुमार
वर्मा
कार्यरत है।
खाद्य सुरक्षा
अधिकारियों
द्वारा
प्रतिमाह
निरीक्षण
किया जाता है।
मिलावट के
कारण लोगों
में गंभीर
बीमारी का कोई
मामला
वर्तमान में
प्रकाश में
नहीं आया है। (घ)
खाद्य एवं
औषधि प्रशासन
जिला छतरपुर
के खाद्य
सुरक्षा
अधिकारियों
द्वारा विगत
तीन वर्षों
में किये गये
निरीक्षणों
का विवरण
पुस्तकालय
में रखे
परिशिष्ट के
प्रपत्र-‘2’ अनुसार
है।
हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल भवनों एवं अन्य कार्य
[स्कूल शिक्षा]
92. ( क्र. 2354 ) डॉ. राजेन्द्र पाण्डेय : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जावरा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल भवनों की कमी विगत कई वर्षों से बनी होकर उत्कृष्ट म.गा.उ.मा.वि. जावरा, माडल स्कूल जावरा तथा क. ने.क.उ.मा.वि. जावरा में मरम्मत, रख-रखाव तथा अपूर्ण स्टॉफ क्वार्टरों की कठिनाईयों के साथ ही पिपलौदा उत्कृष्ठ उ.मा.वि. में मरम्मत, रंगरोगन इत्यादि की आवश्यकता है? (ख) यदि हाँ, तो जावरा नगर तहसील पिपलौदा एवं जावरा में कितने हाई स्कूल, हायर सेकेण्डरी स्कूल भवन विहिन होकर अन्य भवनों में कितने वर्षों से किन-किन स्थानों पर संचालित किये जा रहे है? (ग) क्या भवनों की कमी के कारण उक्त स्कूलों के छात्र-छात्राओं के साथ ही अन्य शालाओं के विद्यार्थी भी प्रभावित हो रहे है? साथ ही माडल स्कूल जावरा के अपूर्ण कार्यों उत्कृष्ठ उ.मा.वि. एवं क.ने.उ.मा.वि. जावरा की जीर्ण-शीर्ण स्थिति से भी अध्ययन अध्यापन प्रभावित हो रहा है? (घ) यदि हाँ, तो भवन विहीन शालाओं को भवन कब प्राप्त होगे? साथ ही माडल स्कूल स्टाफ क्वार्टर के अपूर्ण कार्य कब पूर्ण किये जाएगे तथ पिपलौदा उत्कृष्ट व जावरा उत्कृष्ट तथा क.ने.उ.मा.वि. की मरम्मत हेतु बजट अथवा शाला किस निधि से कार्य कब तक किये जाएंगे?
स्कूल
शिक्षा मंत्री
( कुँवर विजय
शाह ) : (क) जी हाँ। (ख)
जानकारी
संलग्न
परिशिष्ट
अनुसार है। (ग) जी
नहीं। जिन
हाई/हायर
सेकेण्डरी
स्कूल के पास
स्वयं के भवन
नहीं है,
उन
विद्यालयों
की कक्षाएं
नियमित रूप से
प्रा.वि./मा.वि.
के अतिरिक्त
कक्षों में
संचालित हो
रही है। साथ ही
उत्कृष्ट
मा.वि. जावरा
एवं कमला
नेहरू उ.मा.वि.
जावरा में
रा.मा.शि.
अभियान
अंतर्गत
क्रमश: 3
एवं 4
नवीन कक्षों
का निर्माण
किया गया है। (घ)
निर्माण बजट
की उपलब्धता
पर निर्भर है।
समय-सीमा
बताया जाना
संभव नहीं है।
मॉडल स्कूल
जावरा में स्टॉफ
क्वाटर्स के अपूर्ण
निर्माण के
संबंध में
तकनीकी स्ट्रेथ
संबंधी जाँच
रिपोर्ट
प्राप्त
होने के
उपरांत
नियमानुसार
अग्रिम
कार्यवाही की
जावेगी।
परिशिष्ट
- ''उन्नीस''
आदिम जाति एवं अनुसूचित जाति कल्याण विभाग को आवंटित बजट
[आदिम जाति कल्याण]
93. ( क्र. 2416 ) श्री कुँवरजी कोठार : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजगढ़ जिले के अंतर्गत विभाग में वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में प्रश्न दिनांक तक कितनी राशि का बजट प्रावधान किया गया था? (ख) उक्त बजट का विधानसभा क्षेत्रवार आदिम जाति एवं अनुसूचित जाति के लोगों हेतु किन-किन कार्यों के लिए कितना-कितना खर्च किया गया? (ग) विधानसभा क्षेत्र सारंगपुर अंतर्गत उक्त जाति के कितने हितग्राहियों/कार्यों के लिए कितनी-कितनी राशि किन-किन मदों से खर्च की गई? (घ) विधानसभा क्षेत्र सारंगपुर अंतर्गत उक्त जाति की बस्तियों में सड़क निर्माण और प्रकाश व्यवस्था की वर्तमान में क्या स्थिति है? कितने क्षेत्र अभी भी इन सुविधाओं से वंचित है? ग्रामवार जानकारी से अवगत करावें?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) वित्तीय वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में प्रदत्त आवंटन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ‘ अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ‘ अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब‘ अनुसार है। (घ) विधानसभा क्षेत्र सारंगपुर अंतर्गत 50 प्रतिशत तक अनुसूचित जाति जनसंख्या बाहुल्य 13 ग्राम हैं, जिसमें 12 अनुसूचित जाति बाहुल्य ग्रामों में मध्यप्रदेश अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजनांतर्गत प्रावधानों के तहत विगत वर्षों में आवागमन हेतु सी.सी.रोड की सुविधा उपलब्ध कराई गई है। सारंगपुर विधानसभा क्षेत्र के 50 प्रतिशत तक अनुसूचित जनजाति जनसंख्या बाहुल्य चार ग्राम है। जिसमें दो ग्रामों में मध्यप्रदेश अनुसूचित जनजाति बस्ती विकास योजनांतर्गत निहित प्रावधानों के तहत विगत वर्षों में आवागमन हेतु सी.सी.रोड की सुविधा उपलब्ध कराई गई है। सारंगपुर विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत सभी राजस्व ग्राम ऊर्जीकृत हैं। कोई भी ग्राम विद्युत व्यवस्था से वंचित नहीं है।
वेतन निर्धारण तथा एरियर्स का भुगतान
[स्कूल शिक्षा]
94. ( क्र. 2424 ) श्री रामपाल सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शहडोल जिले के जनपद शिक्षा केन्द्र जयसिंहनगर अंतर्गत संकुल मसीरा के प्राथमिक शाला गुरजहाटोला अटरिया में ईजीएस गुरूजी के पद पर पदस्थ श्रीमती ममता सिंह को कलेक्टर (जिला शिक्षा केन्द्र ) शहडोल के पत्र क्र/जिशिके/ईजीएस-सं.शा0शि0वर्ग-३ /२०१४/२६० दिनांक ०५-०३-२०१५ को संविदा शिक्षक वर्ग ०३ के पद पर नियोजन कर दिया गया है। (ख) यदि प्रश्नांश ‘क’ हाँ तो उक्त कर्मचारी का उपरोक्त आदेशानुसार प्रश्न दिनांक तक वेतन निर्धारण करते हुये, एरियर्स का भुगतान कर दिया गया है। यदि हाँ, तो कब से और कितनी राशि दी गई। यदि नहीं, तो क्यों और कब तक दी जावेगी।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) संविदा शाला शिक्षक श्रेणी-3 हेतु शासन द्वारा निर्धारित राशि रूपये 5000/- मासिक पारिश्रामिक संबंधित को भुगतान किया जा रहा है। संविदा शिक्षक के पद पर नियुक्ति दिनांक से 03 वर्ष तक निश्चित राशि रूपये 5000 मासिक प्राप्त होगा। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विद्यालयों में पेयजल उपलब्धता
[स्कूल शिक्षा]
95. ( क्र. 2425 ) श्री रामपाल सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शहडोल जिले के ब्यौहारी तथा जयसिंहनगर जनपद पंचायत क्षेत्रांतर्गत संचालित विद्यालयों में पेयजल उपलब्ध है? (ख) यदि हाँ, तो विद्यालयवार पेयजल स्त्रोतों तथा उनकी वर्तमान स्थिति की जानकारी उपलब्ध करायी जावे।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) हाई/हायर सेकेण्डरी विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ’अ’ अनुसार तथा प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ’ब’ अनुसार है। खराब हैण्डपंपों को सुधरवाने हेतु पी.एच.ई. विभाग को लिखा गया है।
इन्दौर जिले के जिला अस्पताल में कार्यरत डॉक्टरों का अटैचमेंट अन्य अस्पतालों में
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
96. ( क्र. 2436 ) श्री सुदर्शन गुप्ता (आर्य) : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या इन्दौर जिले के जिला अस्पताल में कार्यरत डॉक्टरों का अटैचमेंट अन्य अस्पतालों में किये गये है’? यदि हाँ, तो प्रश्न पूछे जाने तक कितने डॉक्टरों का अटैचमेंट कहाँ-कहाँ किया गया है, संबंधित डॉक्टरों के नाम सहित कार्यरत स्थान व अटैचमेन्ट स्थान एवं अटैचमेन्ट के कारण सहित सूचि उपलब्ध करावें? (ख) क्या प्रश्न ‘क’ अनुसार डॉक्टरों का किया गया अटैचमेन्ट शासन के नियम व निर्देशों के तहत किया गया है? यदि हाँ, तो शासन के नियम व निर्देश उपलब्ध करावे अथवा नहीं तो इन डॉक्टरों के अटैचमेन्ट कब तक समाप्त किये जावेंगे समय-सीमा बतावें?
लोक
स्वास्थ्य और
परिवार
कल्याण
मंत्री ( श्री
रुस्तम सिंह ) :
(क) जी
नहीं, सामान्य
प्रशासन
विभाग के
ज्ञापन
क्रमांक एफ 6-1/2015/1/9 दिनांक 15.4.2015 द्वारा
जारी
स्थानांतरण
नीति वर्ष 2015-16 की
कण्डिका
क्रमांक 11 में
निहित
प्रावधान
अनुसार एक ही
मुख्यालय पर
स्थित
अलग-अलग
कार्यालयों
में सूचारू
कार्य
व्यवस्था की
दृष्टि से
प्रशासकीय
रूप से स्थानीय
परिवर्तन को
मान्य किया
गया है। इंदौर
मुख्यालय में
कार्य सुविधा
की दृष्टि से
पदस्थ किए गए
अधिकारियों
की सूची संलग्न
परिशिष्ट
अनुसार है। (ख) उत्तरांश
’’क’’
अनुसार
प्रश्न
उपस्थित
होता।
परिशिष्ट
- ''बीस''
माध्यमिक शिक्षा मंडल द्वारा बोर्ड परीक्षाओं के लिये परीक्षा केन्द्रों का निर्धारण
[स्कूल शिक्षा]
97. ( क्र. 2438 ) श्री सुदर्शन गुप्ता (आर्य) : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या माध्यमिक शिक्षा मंडल द्वारा बोर्ड परीक्षाओं के लिये परीक्षा केन्द्र निर्धारित किये गये है? यदि हाँ, तो इन्दौर जिले में कितने परीक्षा केन्द्र निर्धारित किये गये है, परीक्षा केन्द्र के नाम सहित सूचि उपलब्ध करावें? (ख) क्या प्रश्नांश ‘क’ अनुसार इन्दौर जिले में निर्धारित परीक्षा केन्द्रों में से कई परीक्षा केन्द्र ऐसे बनाये गये है जो पहले से ब्लैक लिस्टेड (केन्द्रों पर नकल करवाना व अन्य शिकायतें प्राप्त होना) है? (ग) यदि हाँ, तो क्यों, क्या इन स्कूलों के अलावा अन्य स्कूलों को परीक्षा केन्द्र नहीं बनाया जा सकता था, कारण स्पष्ट करें व ऐसे ब्लैक लिस्टेड स्कूलों को परीक्षा केन्द्र से नाम हटाने के लिये विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की जा रही है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) इंदौर जिले में माध्यमिक शिक्षा मण्डल की बोर्ड परीक्षाओं के लिये कुल 129 परीक्षा केन्द्रों का निर्धारण जिला समिति के अनुमोदन पश्चात् माध्यमिक शिक्षा मण्डल भोपाल द्वारा किया गया है। इन्दौर जिले के 129 परीक्षा केन्द्रों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) इन्दौर जिले में परीक्षा केन्द्रों में से किसी भी परीक्षा केन्द्र को ब्लैक लिस्टेड नहीं किया गया है। (ग) उत्तरार्थ (ख) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
आदिवासी उप योजनांतर्गत बजट आवंटन
[आदिम जाति कल्याण]
98. ( क्र. 2465 ) श्री रामकिशन पटेल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) आदिम जाति कल्याण विभाग रायसेन अंतर्गत भिन्न मदों में वर्ष 2013-14 से प्रश्न दिनांक तक कितनी राशि का आवंटन प्राप्त हुआ? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में कितनी-कितनी राशि, किस-किस कार्य में किस-किस विभाग को आवंटित की जाकर व्यय की गई? (ग) वर्ष 2013-14 से प्रश्नांकित दिनांक तक कितने निर्माण कार्य स्वीकृत किये गये? निर्माण कार्यवार लागत क्या है? अभी तक कितने निर्माण कार्य पूर्ण किये गये? कितने अधूरे हैं? अधूरे रहने के कारण क्या हैं? (घ) अधूरे निर्माण कार्यों की निर्माण एजेन्सी कौन है, कितने प्रकरणों में नियमानुसार दण्डात्मक एवं राशि वसूली की कार्यवाही की गई है?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘अ’’ अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘ब’’ अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘स’’ अनुसार है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘स’’ अनुसार है।
कर्मचारियों का स्थानांतरण
[आदिम जाति कल्याण]
99. ( क्र. 2472 ) श्री कालुसिंह ठाकुर : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) धरमपुरी विधान सभा क्षेत्र में आदिम जाति कल्याण विभाग अंतर्गत कितने कर्मचारी कार्यरत हैं तथा कार्यरत कर्मचारी कब से पदस्थ है? संस्थावार बतावें। (ख) क्या शासन नियमानुसार प्रत्येक शासकीय कर्मचारी को एक स्थान पर कार्य करते हुए तीन वर्ष अथवा अधिकतम पाँच वर्ष की अवधि पूर्ण कर लेने पर उन्हें अन्यत्र स्थानांतरित किये जाने के नियम हैं? यदि हाँ, तो विभाग द्वारा उक्त नियमों का कितना पालन किया गया है व किन-किन संस्थाओं से कितने कर्मचारियों का उक्त नियम के तहत स्थानांतरण किया गया है? यदि नहीं, तो उसका कारण बतावें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। म.प्र.शासन, सामान्य प्रशासन विभाग मंत्रालय भोपाल के ज्ञापन क्रमांक ज्ञाप क्र./एफ 6-1/2016/1/9 भोपाल दिनांक 02.8.2016 में उल्लेखित निर्देशों के तहत वर्ष 2015-16 में प्रसारित स्थानांतरण नीति वर्ष 2016-17 में भी मान्य रहेगी। 15 अप्रैल 2015 द्वारा राज्य एवं जिला स्तर पर अधिकारियों/कर्मचारियों की स्थानांतरण नीति वर्ष 2015-16 के बिन्दु क्रमांक 8.7 अनुसार जिलों में पदस्थ प्रथम श्रेणी एवं द्वितीय श्रेणी के कार्यपालिक अधिकारियों के एक ही स्थान पर 03 वर्ष की पदस्थापना पूर्ण कर लेने पर जिले से अन्यत्र प्राथमिकता पर स्थानांतरण किया जा सकेगा। तृतीय श्रेणी कार्यपालिक अधिकारियों एवं कर्मचारियों का भी एक ही स्थान पर सामान्यत: 03 या उससे अधिक पदस्थापना की अवधि पूर्ण कर लेने के कारण स्थानांतरण किया जा सकेगा। यह अनिवार्य नहीं है कि 03 वर्ष पूर्ण कर लेने पर स्थानांतरण किया ही जावे। जिले से उक्त नियमों के तहत विधानसभा क्षेत्र धरमपुरी में संचालित शैक्षणिक संस्थाओं/कार्यालयों से कोई भी कार्यपालिक अधिकारी/कर्मचारी का स्थानांतरण नहीं हुआ हैं।
स्वास्थ्य संस्थाओं द्वारा क्रय सामाग्री
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
100. ( क्र. 2473 ) श्री कालुसिंह ठाकुर : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) धार जिले की धरमपुरी विधानसभा क्षेत्र की शासकीय स्वास्थ्य संस्थाओं यथा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र नालछा, माण्डव, धामनोद व धरमपुरी के द्वारा विगत 05 वर्षों में कितनी-कितनी, व कौन-कौन सी सामग्री वर्षवार क्रय की गई है? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित उक्त क्रय की गई सामग्री टेन्डर बुलाकर खरीदी अथवा बाजार दर पर, समस्त क्रय सामग्री की जानकारी देवें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) धार जिले की धरमपुरी विधानसभा क्षेत्र की शासकीय स्वास्थ्य संस्थाओं यथा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र नालछा, माण्डव, धामनोद व धरमपुरी के द्वारा विगत 05 वर्षों में वर्षवार क्रय की गई सामाग्री की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित सामग्री टेन्डर प्रक्रिया लागू न होने से रोगी कल्याण समिति के माध्यम से प्रदत्त वित्तीय अधिकारों के अन्तर्गत स्थानीय स्तर पर तीन कोटेशनों की न्यूनतम दर पर क्रय की गई थी।
सोनोग्राफी मशीन का उपयोग
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
101. ( क्र. 2481 ) श्री हरदीप सिंह डंग : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सुवासरा विधानसभा क्षेत्र में शामगढ़ शासकीय चिकित्सालय में उपलब्ध सोनोग्राफी मशीन को प्रारम्भ करने हेतु विगत 3 वर्षों में क्या-क्या प्रयास किये गये हैं? (ख) रोगी कल्याण समिति शामगढ़ द्वारा विगत 3 वर्षों में किये गये प्रस्तावों की जानकारी देवें। (ग) सोनोलॉजिस्ट उपलब्ध नहीं होने के कौन-कौन से अधिकारी दोषी हैं बी.एम.ओ., सी.एच.एम.ओ या मुख्य सचिव? (घ) कब तक सुविधा उपलब्ध करवा दी जावेगी? समय-सीमा बतावें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, श्यामगढ़ में पदस्थ चिकित्सक डॉ. राकेश पाटीदार एवं डॉ. शोभा मोरे को सोनोग्राफी में प्रशिक्षण दिलाये जाने हेतु मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा प्रस्ताव दिया गया था परन्तु सोनोग्राफी में प्रशिक्षण के संबंध में माननीय सर्वोच्च न्यायालय के दिशा-निर्देशों के अनुरूप एम.बी.बी.एस. चिकित्सकों द्वारा सोनोग्राफी में प्रशिक्षण के आधार पर सोनोग्राफी मशीन का संचालन नहीं किया जा सकता, अतः इन चिकित्सकों को प्रशिक्षण हेतु आदेशित नहीं किया जा सका। (ख) रोगी कल्याण समिति की साधारण सभा की बैठक दिनांक 16/09/2014, 17/07/2015, 19/09/2016 में डॉ. शोभा मोरे को सोनोग्राफी में प्रशिक्षित कराने का प्रस्ताव दिया। (ग) कोई नहीं, विभाग में सोनोलॉजिस्ट के पर्याप्त संख्या में पद उपलब्ध नहीं है। (घ) निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
विकास कार्यों हेतु स्वीकृत राशि का वितरण
[अनुसूचित जाति कल्याण]
102. ( क्र. 2482 ) श्री हरदीप सिंह डंग : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा मन्दसौर जिले में विगत 3 वर्षों में विकास कार्यों हेतु कितनी-कितनी राशि किस-किस कार्य हेतु स्वीकृत की गई है? विधानसभा क्षेत्रवार जानकारी देवें। (ख) विभाग द्वारा मन्दसौर जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में विधानसभा क्षेत्रवार किन-किन जनप्रतिनिधियों एवं अधिकारियों की अनुशंसा के पत्र प्राप्त कर विकास कार्यों हेतु राशि स्वीकृत की जाती है? (ग) विगत 3 वर्षों में मन्दसौर जिले में किन-किन जनप्रतिनिधियों एवं अधिकारियों की अनुशंसा पत्रों पर ग्रामीण क्षेत्रों में विकास कार्यों हेतु राशि स्वीकृत की गई? अनुशंसाकर्ता का नाम, स्वीकृत राशि, विकास कार्यों के नाम एवं स्थल की जानकारी दें। (घ) सुवासरा विधानसभा क्षेत्र की बसई पंचायत के ग्राम धानडी में स्वीकृत मांगलिक भवन किसकी अनुशंसा या मांग पर निरस्त किया गया तथा इसे पुन: कब स्वीकृत कर निर्माण कार्य किया जावेगा?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। (ख) अनुशंसा के आधार पर कार्य स्वीकृत नहीं किये जाते। नियमों में निर्धारित मापदण्डों की पूर्ति होने पर एवं कार्य योजना में आने पर कार्य स्वीकृत किये जाते हैं। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है। (घ) सुवासरा विधानसभा क्षेत्र के बसई ग्राम पंचायत धनडी में मांगलिक भवन स्वीकृत नहीं किया गया है। अत: इसे निरस्त अथवा पुन: स्वीकृत करने का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति के निवासरत व्यक्तियों की संख्या
[विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्धघुमक्कड़ जाति कल्याण]
103. ( क्र. 2500 ) श्री भारत सिंह कुशवाह : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) विधान सभा क्षेत्र ग्वालियर ग्रामीण 14 में विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ समाज की कितनी जनसंख्या है तथा किस-किस गांव एवं कहाँ-कहाँ निवासरत है? (ख) प्रश्नांश (क) क्षेत्र में निवासरत इस समाज के कितने नागरिकों को शासन की योजनाओं का लाभ विगत तीन वर्ष से प्रश्न दिनांक तक दिया गया। भविष्य में इनकी सुविधा हेतु क्या-क्या योजनायें प्रस्तावित है अथवा दी जायेगी? (ग) क्या बजट में विमुक्त, घुमक्कड़ समाज के ग्रामों को पक्की रोड से एवं आंतरिक सड़कें बनाने का प्रावधान किया है?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) वर्तमान में विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जातियों की जनगणना/सर्वेक्षण का कार्य न होने से जानकारी दी जाना संभव नहीं है। (ख) विगत 3 वर्षों से ग्वालियर जिले को इस वर्ग के 41 हितग्राहियों को विमुक्त जाति आवास योजनान्तर्गत रूपये 12.20 लाख की अनुदान राशि उपलब्ध कराई गयी है। भविष्य में इस वर्ग के लोगों के आर्थिक विकास हेतु मुख्य मंत्री स्वरोजगार योजना एवं आवास योजना प्रस्तावित है। (ग) जी हाँ। विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ समाज के ग्रामों में पक्की रोड से आंतरिक सड़क बनाने के लिये बस्ती विकास योजना संचालित की जा रही है।
रोगी कल्याण समिति की बैठक
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
104. ( क्र. 2513 ) श्री संजय शर्मा : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला रायसेन में रोगी कल्याण समिति द्वारा किन-किन स्थानों पर कितनी दुकानों का निर्माण किया गया? किन-किन दुकानों को किन-किन शर्तों पर किन-किन को किराये पर दिया गया। (ख) किन-किन किरायदारों से 01 फरवरी 2017 की स्थिति में कितना किराया लेना बकाया है? उक्त किराया वसूल करने हेतु विभाग द्वारा क्या-क्या कार्यवाही की गई? (ग) 01 जनवरी 2016 से प्रश्न दिनांक तक किन-किन रोगी कल्याण समितियों की कब-कब बैठक हुई? उक्त बैठकों में क्या-क्या प्रस्ताव पारित हुये तथा उक्त प्रस्तावों पर आज दिनांक तक क्या-क्या कार्यवाही की गई? किन-किन प्रस्तावों पर कार्यवाही नहीं की गई तथा क्यों? (घ) जिला रायसेन में संजीवनी चलित चिकित्सा इकाई के संचालन की क्या व्यवस्था है? 01 जनवरी 2016 से प्रश्न दिनांक तक कहाँ-कहाँ पर उक्त वाहन गया तथा कितने मरीजों का इलाज किया गया?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’ब’’ अनुसार है। दुकानदारों को बकाया राशि जमा करने हेतु नोटिस जारी किये गये है, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’स’’ अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’द’’ अनुसार है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’ई’’ अनुसार है। (घ) जिला रायसेन में 03 संजीवनी चलित चिकित्सा इकाइयां विकासखण्ड ओबेदुल्लागंज, सांची एवं सिलवानी/बेगमगंज में संचालित हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’फ’’ अनुसार है।
क्रय की गई सामग्री
[स्कूल शिक्षा]
105. ( क्र. 2630 ) चौधरी
मुकेश सिंह
चतुर्वेदी :
क्या स्कूल
शिक्षा
मंत्री महोदय
यह बताने की कृपा
करेंगे कि (क) आयुक्त
लोक शिक्षण
भोपाल के पत्र
क्र./बजट/2015/46
भोपाल दिनांक 06/05/2016 की
कंडिका-2
एवं 4 के
द्वारा
निर्धारित
भण्डार क्रय
नियम का पालन
न करते हुई
प्राचार्य
शास. उत्कृष्ट
उ.मा.वि.
सेवढ़ा,
जिला दतिया
द्वारा रूपये 20,73,500/- (बीस लाख
तेहत्तर
हजार पाँच सौ)
आहरण कर स्टेशनरी, फर्नीचर
आदि क्रय करने
में किए गये
व्यय की क्या
सक्षम
अधिकारी
द्वारा
सामग्री क्रय
करने की स्वीकृति
प्रदान की गई
है, तो
स्वीकृत
आदेश की प्रति
उपलब्ध
करावें। (ख) यदि
सामग्री क्रय
करने के संबंध
में निविदा प्रक्रिया
अपनाई गई है, तो उसकी
प्रमाणित
प्रति एवं
फर्म का नाम
बतावें। (ग) प्राचार्य
शास. उत्कृष्ट
उ.मा.वि.
सेवढ़ा,
जिला दतिया को
लोक शिक्षण
संचालनालय भोपाल
के पत्र
क्रमांक स्था/1-सत/सी/दतिया/2015/102 दिनांक 14/02/2016 को कारण
बताओ सूचना
पत्र की
वर्तमान
स्थिति क्या
है एवं जाँच
में कितना समय
लगेगा और जाँच
के क्रम में
प्राचार्य को
निलंबित किया
जायेगा?
(घ)
वित्तीय
अनियमितता के
प्रकरण में
जाँच के लिये
कितनी
समय-सीमा शासन
द्वारा
निर्धारित
है। आदेश की
प्रति उपलब्ध
करावें। (ड.)
प्रकरण की
जाँच में किस
स्तर के
अधिकारी
द्वारा विलंब
किया जा रहा
है। क्या
उसके विरूद्ध
कार्यवाही की
जावेगी?
स्कूल
शिक्षा
मंत्री (
कुँवर विजय
शाह ) : (क) से (ड.) जानकारी
एकत्रित की जा
रही है।
अध्यापकों की वृत्तिकर व आयकर की काटी गई राशि
[स्कूल शिक्षा]
106. ( क्र. 2647 ) श्री रजनीश सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सिवनी जिले में डी.डी.ओ द्वारा अध्यापक संवर्ग के वेतन से वित्तीय वर्ष 2014-15 व 2015-16 में वृत्तिकर एवं आयकर की राशि काटी गई थी? यदि नहीं, तो क्यों? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार यदि राशि काटी गई है, तो क्या डी.डी.ओ. द्वारा काटी गई राशि कोषालय के माध्यम से संबंधित मद में जमा कराई गई है या नहीं? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) यदि हाँ, तो इसके लिए क्या प्रक्रिया अपनाई गई और यदि नहीं, तो वृत्तिकर व आयकर की काटी गई राशि अध्यापकों को कब तक वापिस कर दी जावेगी? जमा न करने वाले डी.डी.ओ. की सूची देवें? (घ) वृत्तिकर एवं आयकर की राशि वेतन से काटने के उपरांत संबंधित मद में जमा न करने वाले डी.डी.ओ. पर क्या कार्यवाही की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी हाँ। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) डी.डी.ओ प्राचार्य द्वारा अध्यापक के वेतन के अनुसार वृत्तिकर की गणना कर प्रतिमाह वेतन में से समान किस्त/एकमुश्त कोषालय के माध्यम से नियमित कर्मचारी के समान काटा जाता है। वृत्तिकर एवं आयकर की राशि कोषालय के माध्यम से वेतन हेतु निर्मित कम्प्यूटर सॉफ्टवेयर से वेतन जनरेट करने पर स्वतः ही काट कर संबंधित मद में जमा कर दी जाती है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) प्रश्नांश (ग) के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
केन्द्र एवं राज्य सरकार से प्राप्त राशि का आवंटन
[आदिम जाति कल्याण]
107. ( क्र. 2676 ) श्री संजय उइके : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग में केन्द्र एवं राज्य सरकार से प्राप्त बजट/राशि का परियोजनावार/जिलेवार, योजनावार/मदवार आवंटन करने का क्या प्रावधान/आधार/मापदण्ड है? (ख) क्या राशि आवंटन का आधार/मापदण्ड जनसंख्या एवं क्षेत्रफल है, तो किस परियोजना/जिले की जनसंख्या एवं क्षेत्रफल के आधार पर वित्तीय वर्ष 2012-13 प्रश्न दिनांक तक जिला बालाघाट में आदिवासी परियोजनावार केन्द्र एवं राज्य सरकार द्वारा प्राप्त योजनावार/मदवार राशि कितनी-कितनी आवंटित की गयी एवं कितनी-कितनी राशि व्यय की गई बतावें? (ग) वित्तीय वर्ष 2016-17 की केन्द्र सरकार से विशेष केन्द्रीय सहायता एवं अनुच्छेद 275 (1) के तहत प्राप्त राशि का आवंटन आदिवासी परियोजनाओं को आवंटित नहीं करने का क्या कारण है?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र -‘‘एक‘‘ अनुसार है। (ख) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र -‘‘दो‘‘ अनुसार है। (ग) प्रश्नांश अंतर्गत दिनांक 12-01-2017 को सचिव भारत सरकार की अध्यक्षता में प्रोजेक्ट अप्रेजल कमेटी की बैठक के कार्यवाही विवरण दिनांक 25.01.2017 में मदवार/कार्यवार राशि का अनुमोदन प्रदान किया गया।
विद्यालयों में शासन से प्रदत्त शाला विकास की राशि
[स्कूल शिक्षा]
108. ( क्र. 2689 ) श्री यशपालसिंह सिसौदिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रतलाम, मंदसौर एवं नीमच जिले के हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी विद्यालयों/कार्यालयों में किस-किस तरह की (SMDC, इको क्लब, इंस्पायर अवार्ड आदि) राशि किस-किस मद में दिनांक 1 जनवरी 2015 के पश्चात शासन से प्राप्त हुई, क्या शासन द्वारा प्रदत्त राशि के पूर्ण उपयोग के बाद कार्य पूर्णता प्रमाण-पत्र विद्यालय को देना अनिवार्य है? यदि हाँ, तो उक्त अवधि में जिले के किन-किन विद्यालयों ने किस-किस राशि के लिए कार्य पूर्णता पत्र दिया, ऐसी राशि के व्यय की जाँच किस अधिकारी ने की, उसमें क्या अनियमितता पाई गई? अधिकारी के नाम सहित जानकारी देवें। (ख) दिनांक 1 फरवरी 2016 की स्थिति में रतलाम, मंदसौर, नीमच जिले में विद्यालयों के विभिन्न मद में जमा राशि का दिनांक 1 जनवरी 2010 के पश्चात इसका ऑडिट (अंकेक्षण) किस-किस ऑडिटर ने किया? (ग) क्या गत कुछ वर्षों में इंस्पायर अवार्ड कार्यक्रम के लिए प्राप्त राशि में रतलाम, मंदसौर जिले में अधिकारियों द्वारा नकली बिल लगाकर भारी अनियमितता कर बच्चों की सुविधा में कमी की जा रही है? बच्चों की प्रदर्शनी के मॉडल बाजार से खरीदे जा रहे हैं। विगत एक वर्ष में इसकी शिकायत कब-कब, किस-किस व्यक्ति ने की? की गई कार्यवाही से अवगत करायें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। जी हाँ। संस्थाओं द्वारा उपयोगिता प्रमाण-पत्र जिला शिक्षा अधिकारी को प्रस्तुत किए जाते है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। कोई अनियमितता प्रकाश में नहीं आई है। (ख) विद्यालयों के विभिन्न मदों में जमा राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है। अंकेक्षण की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ग) जी नहीं। इस संबंध में कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई।
सामग्री/स्टेशनरी की जानकारी
[आदिम जाति कल्याण]
109. ( क्र. 2691 ) श्री संजय उइके : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या यह सही है कि श्री वाय.के. डोंगरे प्राचार्य शा. उत्कृष्ट विद्यालय, कौशल उन्नयन केन्द्र, मण्डल हायर सेकेण्डरी स्कूल बिरसा एवं शा. उत्कृष्ट विद्यालय, कौशल उन्नयन केन्द्र, मण्डल हायर सेकेण्डरी स्कूल बैहर के पद पर पदस्थ रहे है? (ख) यदि हाँ, तो उनके कार्यकाल में दोनों पदस्थी के दौरान कब-कब सामग्री/स्टेशनरी कितनी-कितनी, किस-किस दर से किन-किन फर्मों/एजेंसी से खरीदा गया? खरीदी सामग्री/स्टेशनरी के बिल व्हाउचर की प्रति, स्टॉक पंजी की प्रति, कितने छात्र/छात्राओं को क्या-क्या सामग्री प्रदाय की गयी की जानकारी उपलब्ध करावें? (ग) क्या श्री वाय. के. डोंगरे प्राचार्य कन्या शिक्षा परिसर बालाघाट में पदस्थ है, तो जिला मुख्यालय से 90 कि.मी. दूर शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय गढी में किस दबाव में, किस अधिकारी के आदेश से प्रभारी प्राचार्य बनाने का क्या कारण है?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी हाँ। विभागांतर्गत प्राचार्यों के रिक्त पद एवं कमियों की स्थिति को दृष्टिगत रखते हुये प्रशासनिक व्यवस्था के अंतर्गत कलेक्टर बालाघाट के आदेश क्र/4275/स्था/02/आवि/2015, दिनांक 16.01.15 के द्वारा शा.उ.मा.वि. गढी के व्यवस्थित संचालन हेतु श्री वाय.के. डोंगरे को शा.उ.मा.वि. गढी का प्रभार सौंपा गया है।
शासकीय शिक्षण महाविद्यालय तथा डाइट की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
110. ( क्र. 2703 ) सुश्री हिना लिखीराम कावरे : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में कुल कितने शासकीय शिक्षण महाविद्यालय तथा डाइट हैं? जिले के नाम सहित जानकारी दें। (ख) उक्त संस्थाओं में स्वीकृत पद तथा वर्तमान में कार्यरत स्टॉफ की जानकारी शैक्षणिक योग्यता सहित दें। (ग) क्या उक्त संस्थानों को राष्ट्रीय शिक्षा अध्यापक परिषद् (NCTE) से मान्यता प्राप्त है? प्राचार्य तथा शैक्षणिक स्टॉफ के लिए न्यूनतम शैक्षणिक योग्यताएं क्या निर्धारित है तथा कार्यरत स्टॉफ क्या इन योग्यताओं को पूर्ण करता है? (घ) विभाग के पास कार्यरत शिक्षकों को PHD तथा M.Ed कराने हेतु क्या व्यवस्था है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) प्रदेश में 02 प्रगत अध्ययन शैक्षिक संस्थान, 07 शिक्षा महाविद्यालय एवं 45 डाइट है। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। (ख) स्वीकृत पदों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है एवं कार्यरत स्टॉफ की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है। (ग) जी हाँ। न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-द अनुसार है। कार्यरत स्टॉफ में से अधिकांश इन योग्यताओं की पूर्ति करते हैं। (घ) शासकीय शिक्षण प्रशिक्षण संस्थानों में कार्यरत अकादमिक लोक सेवकों को एम.एड. कराने की व्यवस्था शिक्षा महाविद्यालयों एवं प्रगत शैक्षिक अध्ययन संस्थानों में है। ऐसे अकादमिक सदस्य जो पी.एच.डी. करना चाहते हैं, उन्हें विधिवत आवेदन प्राप्त होने पर नियमानुसार अनुमति प्रदान की जाती है।
संतान पालन अवकाश से वंचित किया जाना
[स्कूल शिक्षा]
111. ( क्र. 2704 ) सुश्री हिना लिखीराम कावरे : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासकीय महिला कर्मचारियों को अपने अठारह साल तक की उम्र की संतान की देख-रेख के लिए अपने पूरे सेवाकाल में 730 दिनों के संतान पालन अवकाश से अध्यापक संवर्ग की महिलाओं को वंचित किया गया है? (ख) जिन उद्देश्यों से संतान पालन अवकाश के प्रावधान किये गये हैं, अध्यापक संवर्ग की महिलाओं को इससे वंचित रखने पर उनकी संतान के बौद्धिक मानसिक तथा शारीरिक विकास पर पढ़ने वाले प्रतिकूल असर के लिये कौन जिम्मेदार है? (ग) महिलाओं तथा बच्चों के प्रति संवेदनशील मुख्यमंत्री की सरकार में लिये गये इस असंवेदनशील निर्णय पर क्या सरकार पुनर्विचार करेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) संतान पालन अवकाश का प्रावधान प्रदेश में दिनांक 22 अगस्त 2015 से शासकीय महिला कर्मचारियों हेतु लागू किया गया है। प्रदेश में संविदा शाला शिक्षक के सीधी भर्ती अन्तर्गत 50 प्रतिशत पद महिलाओं के लिए आरक्षित है। महिला अध्यापकों को संतान पालन अवकाश से अध्यापन व्यवस्था पर विपरीत प्रभाव संभावित होने से संतान पालन अवकाश का प्रावधान इन पर लागू नहीं किया गया है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) इस विषय पर समग्र रूप से विचार कर यथा समय निर्णय लिया जावेगा।
युक्ति-युक्तकरण में अनियमतता
[स्कूल शिक्षा]
112. ( क्र. 2725 ) श्री इन्दर सिंह परमार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शाजापुर जिले में कम छात्र संख्या होने के कारण बंद की गई प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं से मुक्त हुए अध्यापकों को युक्ति-युक्तकरण के द्वारा किन-किन अध्यापकों को किस-किस शालाओं में पदस्थ किया गया है? सूची देवें। (ख) क्या प्रश्नांश "क" में उल्लेखित बंद शालाओं के अध्यापकों को युक्ति-युक्तकरण में काउंसलिंग के द्वारा निकटतम शाला में रिक्त पद पर पदस्थ किया जाना था? बंद शालाओं से नई पदस्थापना वाली शालाओं की दूरी कितनी कितनी है? विकासखंड का भी उल्लेख करें। (ग) प्रश्नांश "क" में उल्लेखित बंद शालाओं से अध्यापकों को युक्ति-युक्तकरण में जानबूझकर लंबी दूरी पर पदस्थ क्यों किया गया? क्या युक्ति-युक्तकरण के नाम पर अप्रत्यक्ष रूप से स्थानांतरण किया गया है? (घ) शाजापुर जिले में अध्यापकों का युक्ति-युक्तकरण नियम विरुद्ध किया गया है, क्या इसकी जाँच करायी जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) म.प्र. स्कूल शिक्षा विभाग, मंत्रालय भोपाल के आदेश क्रमांक/एफ 01-42/2014/20-1, दिनांक 14.09.2016 में दिये गये निर्देशों के अनुसार स्वैच्छिक काउंसिलिंग के माध्यम के आधार पर 135 अध्यापकों को पदस्थ किया गया है। स्वैच्छिक काउंसिलिंग में स्वैच्छा से स्थान का चयन करने की छूट होने से दूरी का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है। शेष 09 अध्यापकों के काउंसिलिंग में सम्मिलित न होने से या काउंसिलिंग में स्थान चयन नहीं करने से उन्हें प्रशासनिक रूप से पदस्थ किया गया है। (ग) प्रश्नांश (ख) के उत्तर अनुसार। (घ) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय स्कूलों में फर्नीचर की उपलब्धता
[स्कूल शिक्षा]
113. ( क्र. 2726 ) श्री इन्दर सिंह परमार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) उज्जैन जिले में शासकीय हायर सेकेण्डरी स्कूल वर्तमान में चल रहे हैं? स्कूलों में कितने विद्यार्थियों को बैठने के लिए फर्नीचर है? सूची दें। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित स्कूलों में से जिन स्कूलों में फर्नीचर नहीं है, उनमें विद्यार्थियों को कक्षाओं में बैठने के लिए क्या व्यवस्था है? स्कूलवार जानकारी देवें। (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित स्कूलों में से जिसमे बैठने हेतु फर्नीचर की सुविधा नहीं है, उनमें क्या फर्नीचर उपलब्ध कराये जायेंगे? यदि हाँ, तो कब तक।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) उज्जैन जिले में 89 हायर सेकेण्डरी स्कूल वर्तमान में चल रहे हैं। इन विद्यालयों में कुल 29128 विद्यार्थी अध्ययनरत हैं, जिनमें से 17500 विद्यार्थियों हेतु फर्नीचर उपलब्ध है। जानकरी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जिन स्कूलों में छात्र संख्या के मान से फर्नीचर की कमी है, उनमें छात्रों को टाट-पट्टी पर बिठाया जाता है। स्कूलवार जानकारी संलग्न परिशिष्ट के कॉलम नम्बर-7 अनुसार है। (ग) फर्नीचर उपलब्ध कराया जाना बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
रिक्त पदों की पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
114. ( क्र. 2743 ) श्री नारायण सिंह पँवार : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला योजना समिति जिला राजगढ़ की बैठक दिनांक 26.04.2016 में माननीय प्रभारी मंत्री महोदया द्वारा सिविल अस्पताल ब्यावरा में बाल एवं शिशु रोग विशेषज्ञ के दो पद स्वीकृत होकर लम्बे समय से रिक्त होने से आ रही परेशानियों के दृष्टिगत पद की उपलब्धता शीघ्र करने हेतु दिये गये निर्देशों के पालन में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी राजगढ़ द्वारा पत्र क्र./स्थापना/2016/7291 राजगढ़ दिनांक 03.06.2016 से आयुक्त संचालनालय स्वास्थ्य सेवाएं मध्यप्रदेश भोपाल से शिशु एवं बाल रोग विशेषज्ञ की पदस्थापना हेतु पत्र लिखा गया था? (ख) क्या प्रश्नकर्ता द्वारा भी उक्त पदों की पूर्ति हेतु माननीय मुख्यमंत्री महोदय, माननीय स्वास्थ्य मंत्री महोदय, प्रमुख सचिव लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण से अनेकों बार निवेदन किया गया है? (ग) यदि हाँ, तो क्या प्रश्न दिनांक तक उक्त रिक्त पदों की पूर्ति कर दी गई है? यदि नहीं, तो क्यों? कारण सहित बतावें। (घ) उपरोक्तानुसार क्या शासन शिशुओं के त्वरित उपचार के दृष्टिगत सिविल अस्पताल ब्यावरा में रिक्त शिशु एवं बाल रोग विशेषज्ञ के पदों की पूर्ति करेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) जी नहीं। सिविल अस्पताल, ब्यावरा हेतु बंध-पत्र स्नातकोत्तर डिग्री/डिप्लोमाधारी चिकित्सकों की पदस्थापना हेतु तैयार की गई सूची में शिशुरोग चिकित्सक हेतु एक रिक्ति प्रदर्शित की गई थी परंतु किसी चिकित्सक द्वारा चयन न करने के कारण पदपूर्ति नहीं की जा सकी है। प्रदेश में शिशुरोग विशेषज्ञ/शिशुरोग योग्यताधारी चिकित्सक की कमी के कारण पदस्थापना नहीं की जा सकी है। (घ) जी हाँ, मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग के माध्यम से 1896 पदों हेतु साक्षात्कार प्रक्रिया प्रचलन में है। चयन सूची प्राप्त होने पर शिशुरोग योग्यता के चिकित्सक की पदस्थापना यथाशीघ्र की जावेगी।
उदयपुरा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत किए गये कार्य
[अनुसूचित जाति कल्याण]
115. ( क्र. 2763 ) श्री रामकिशन पटेल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन/विभाग द्वारा अनुसूचित जाति कल्याण हेतु शासन की विभिन्न योजनाओं का क्रियान्वयन किया जा रहा है? (ख) यदि हाँ, तो रायसेन जिले की उदयपुरा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत आने वाले संपूर्ण क्षेत्र में क्या योजनाओं का क्रियान्वयन किया जा रहा है? (ग) यदि हाँ, तो वर्ष, 2013 से लेकर प्रश्न दिनांक तक शासन/विभाग द्वारा क्या-क्या कार्य किये जाकर किन-किन योजनाओं का क्रियान्वयन कराया गया है? (घ) साथ ही उक्त वर्षों में उपरोक्त क्षेत्रांतर्गत कौन-कौन से कार्य किन-किन स्थानों पर किस-किस प्रकार से कराए जाकर उन पर कितना-कितना व्यय किया गया?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ एवं ‘स’ अनुसार है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘द’ अनुसार है।
प्रतिभा पर्व पर खर्च होने वाली राशि की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
116. ( क्र. 2777 ) श्रीमती योगिता नवलसिंग बोरकर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा इस वर्ष मनाए गए प्रतिभा पर्व पर कितनी राशि खर्च की गई? (ख) प्रतिभा पर्व में छात्र-छात्राओं को क्या लाभ मिला?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) इस वर्ष प्रदेश में प्रतिभा पर्व हेतु जारी बजट राशि की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रतिभा पर्व में छात्र-छात्राओं का शैक्षणिक स्तर का अर्द्धवार्षिक मूल्यांकन, मूल्यांकन के आधार पर अकादमिक कमियों का चिन्हांकन तथा उस पर सुधारात्मक कार्यवाही, कठिन अवधारणाओं का चिन्हांकन एवं उन पर विशेष शिक्षण वार्षिक उत्सव से छात्रों में उत्साह एवं मनोबल वृद्धि इत्यादि लाभ प्राप्त होता है।
शाला भवनों का निर्माण कार्य
[स्कूल शिक्षा]
117. ( क्र. 2787 ) श्री गोविन्द सिंह पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नरसिंहपुर जिले के गाडरवारा विधान सभा क्षेत्र में ऐसे कितने शाला भवन हैं, जिनका निर्माण कार्य अभी तक अपूर्ण है तथा कब तक पूर्ण किया जायेगा? पूर्ण न होने के क्या कारण है? शालावार जानकारी देवें। (ख) ऐसे कितने शाला भवन हैं, जिनमें निर्माण एजेन्सी द्वारा अतिरक्ति राशि निकाल ली गई है। ऐसी स्थिति में इनके कार्यों को कैसे पूर्ण कराया जायेगा? (ग) कितने ऐसे शालाएं है, जो भवनविहीन है तथा उनमें शैक्षणिक कार्य कैसे संचालित हो रहे है? शालावार जानकारी देवें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) हाई स्कूल व हायर सेकेण्डरी तथा प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों संबंधी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 व 'अ' अनुसार है। निर्माण एजेन्सी की धीमी गति/उदासीनता के कारण कार्य अपूर्ण है। पूर्णता की समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ख) हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी विद्यालयों के संबंध में जानकारी निरंक है। प्राथमिक व एक माध्यमिक शाला भवनों की निर्माण एजेन्सी द्वारा अतिरिक्त राशि आहरित कर ली गई है, ऐसे कार्यों की निर्माण एजेन्सी से राशि वसूल कर कार्य पूर्ण कराया जाएगा।
जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'ब' अनुसार है। (ग) हाई स्कूकल व हायर सेकेण्डरी विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। कोई भी प्राथमिक/माध्यमिक शाला भवन विहीन नहीं है।
गाडरवारा सिविल अस्पताल का उन्नयन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
118. ( क्र. 2788 ) श्री गोविन्द सिंह पटेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नरसिंहपुर जिले के गाडरवारा विधानसभा में गाडरवारा स्थित सिविल अस्पताल वर्तमान में कितने बिस्तर का है? (ख) अस्पताल में चिकित्सकों एवं अन्य कर्मचारियों के कितने पद स्वीकृत हैं, कितने पद भरे हैं एवं कितने रिक्त हैं? रिक्त पदों को कब तक भर दिया जायेगा? (ग) मा. मुख्यमंत्री की 100 बिस्तर की घोषणा के पश्चात् अस्पताल का उन्नयन हो गया है? यदि हाँ, तो कितने चिकित्सकों एवं अन्य कर्मचारियों के कितने पद स्वीकृत हैं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) सिविल अस्पताल गाडरवारा 100 बिस्तरीय है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। रिक्त पदों की पूर्ति की कार्यवाही निरंतर जारी है, निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है। (ग) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
अध्यापक संवर्ग को नियुक्ति दिनांक से वरिष्ठता
[स्कूल शिक्षा]
119. ( क्र. 2791 ) श्री दिनेश राय (मुनमुन) : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या लोक शिक्षण संचालनालय म.प्र.भोपाल के पत्र क्र/शि.क.ए./2013/1034 दिनांक 18/04/2013 एवं अपर सचिव म.प्र. शासन पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के पत्र क्र.एफ-1-2/ 2013/22/पं-2 भोपाल दिनांक 21 फरवरी 2013 तथा संचालक लोक शिक्षण म.प्र.भोपाल के मार्गदर्शन पत्र पृष्ठांकन क्र/शिक्षाकर्मी/ए./02/2014/458 दिनांक 26/03/2014 द्वारा संविदा शाला शिक्षकों को नियुक्ति दिनांक से वरिष्ठता (संविदा अवधि सहित) क्रमोन्नति/पदोन्नति दिये जाने के निर्देश जारी किये गये थे? (ख) प्रश्नांश (क) यदि हाँ, तो क्या सिवनी जिले में उपरोक्त आदेशों का पालन करते हुये नियुक्ति दिनांक से वरिष्ठता, क्रमोन्नति, पदोन्नति के आदेश जारी किये गये हैं? (ग) क्या सिवनी जिले में वर्ष 2016 में जारी वरिष्ठता सूची में संविदा शाला शिक्षकों/अध्यापकों (संविदा अवधि सहित) को नियुक्ति दिनांक से वरिष्ठता का निर्धारण किया गया? यदि नहीं, तो क्यों? क्या माह नवम्बर 2015 में हुई पदोन्नति में नियुक्ति दिनांक से वरिष्ठता का पालन किया गया है? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) क्या म.प्र. शासन द्वारा वर्ष 1998 में नियुक्ति शिक्षा कर्मियों को नियुक्ति दिनांक से वरिष्ठता/क्रमोन्नति/पदोन्नति का लाभ दिये जाने के आदेश संविदा शाला शिक्षकों की भांति जारी किये गये है या नहीं? यदि नहीं, तो इनके साथ सौतेला व्यवहार क्यों किया जा रहा है जबकि मान. उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा नियुक्ति दिनांक से लाभ दिये जाने के स्पष्ट निर्देश शासन को दिये जा चुके हैं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) जी हाँ। माह नवम्बर, 2015 में हुई पदोन्नति में नियुक्ति दिनांक से वरिष्ठता का पालन किया गया है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) अध्यापक संवर्ग के नियम, 2008 में शिक्षाकर्मियों के संविलियन के पश्चात् शिक्षाकर्मी के रूप में उनके द्वारा की गई सेवा की गणना केवल पदोन्नति/क्रमोन्नति/ वरिष्ठता के प्रयोजन हेतु किये जाने का उल्लेख है। डब्ल्यू.पी. 19431/2015 श्रीमती किरण गौतम विरूद्ध म.प्र. शासन में पारित निर्णय दिनांक 11/01/2016 में नियुक्ति दिनांक से लाभ देने के निर्देश नहीं है अपितु याचिकाकर्ता के द्वारा अभ्यावेदन प्रस्तुत करने पर अभ्यावेदन पर विचार कर निराकृत करने के आदेश है।
विद्यालयों में उपलब्ध सुविधाएं
[स्कूल शिक्षा]
120. ( क्र. 2792 ) श्री दिनेश राय (मुनमुन) : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी विधानसभा क्षेत्र के किन-किन शासकीय प्राथमिक, माध्यमिक, हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में भवन, बाउण्ड्रीवॉल, खेल मैदान, शौचालय, पेय-जल, पानी की उपलब्धता के संसाधन, विद्युत कनेक्शन प्रकाश उपकरण, पंखे एवं विद्यार्थियों हेतु फर्नीचर की उपलब्धता है? विद्यालयवार बतायें। (ख) प्रश्नांश (क) के तहत जिन विद्यालयों में उपरोक्त सुविधायें नहीं है, तो क्या-क्या और इन सुविधाओं की उपलब्धता/पूर्ति हेतु विगत तीन वर्षों में कब-कब, किस-किस के द्वारा किन-किनको प्रस्ताव दिये गये? विद्यालयवार बतायें। (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में विद्यालयों हेतु दिये गये प्रस्तावों पर कब-कब किस-किसके द्वारा क्या-क्या कार्यवाही पर स्वीकृति प्रदान की गई और प्रस्ताव कहाँ-कहाँ लंबित है? लंबित प्रस्तावों की स्वीकृति कब तक प्रदान कर दी जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है तथा प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। (ख) हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी से संबंधित यू-डाइस के माध्यम से जानकारी जिलों से संकलित की जाती है एवं बजट की उपलब्धता पर कार्य स्वीकृत किये जाते हैं, जिनकी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। जिन प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों में उपरोक्त सुविधाएं नहीं है, वहाँ सुविधाओं की उपलब्धता/पूर्ति हेतु विगत तीन वर्षों से प्रस्ताव वार्षिक कार्ययोजना में शामिल कर भारत शासन को प्रेषित किये गये हैं। विद्यालयवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार। (ग) हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी से संबंधित जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक के कालम 13 अनुसार है। लंबित प्रस्ताव की स्वीकृति बजट उपलब्धता पर निर्भर करती है। प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालय में प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में भारत शासन से स्वीकृति अनुसार स्वीकृत कार्यों की वर्षवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार। लंबित प्रस्तावों पर भारत शासन से अनुमोदन उपरांत स्वीकृति प्रदान की जा सकेगी। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
जिला स्तरीय सतर्कता एवं निगरानी समिति की बैठक
[अनुसूचित जाति कल्याण]
121. ( क्र. 2834 ) श्री विष्णु खत्री : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा कार्यालय सहायक आयुक्त, अनु. जाति एवं जनजाति विकास विभाग भोपाल को माह अप्रैल 2015 से अक्टूबर 2016 के मध्य किस-किस मद में कितनी राशि प्राप्त हुयी थी? मदवार विवरण उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) में मदवार राशि में से संबंधित कार्यालय द्वारा कितनी कितनी राशि का व्यय किस-किस एजेन्सी को किया गया है, माहवार एवं मदवार विवरण उपलब्ध करावें। क्या संचालित छात्रावासों के लिये जो सामग्री क्रय की जाती है उसके लिये कोई एजेन्सी को निर्धारित की जाती है अथवा नहीं यदि हाँ, तो किस आधार पर एजेन्सी का निर्धारण किया जाता है एवं यदि नहीं, तो सामग्री क्रय किये जाने के संबंध में क्या मार्गदर्शी नियमावली है, विवरण उपलब्ध करावें। (ग) जिला स्तरीय निगरानी एवं सर्तकता समिति की बैठकों को आयोजित कराये जाने के संबंध में विभाग के क्या दिशा-निर्देश हैं? प्रति उपलब्ध करावें। माह जनवरी 2015 से माह दिसम्बर 2016 के मध्य विभाग की जिला स्तरीय निगरानी एवं सतर्कता समिति की बैठकों का कब कब आयोजन किया गया है? तिथिवार सूची एवं प्रस्तुत एजेण्डा एवं उस पर हुयी कार्यवाही तथा कार्यवाही विवरण पंजी की छायाप्रति उपलब्ध करावें। (घ) प्रश्नांश (ग) में दर्शित समिति की बैठकों का आयोजन इस समयावधि में नहीं किया गया, तो इसके क्या कारण रहे एवं कौन-कौन अधिकारी इस हेतु दोषी हैं? बैठक न होने पर संबंधित अधिकारी के विरूद्ध क्या कार्यवाही प्रस्तावित की गयी है? यदि कोई कार्यवाही प्रस्तावित नहीं की गयी है, तो इसके क्या कारण रहे एवं इसमें कौन-कौन अधिकारी दोषी हैं?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन अवधि में जिले को आवंटित राशि की मदवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है। (ग) बैठकों के आयोजन हेतु विभाग के दिशा-निर्देशों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘स’ अनुसार, बैठकों की तिथिवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘द’ अनुसार एवं समिति की बैठक के एजेण्डा व कार्यवाही विवरण की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ई’ अनुसार है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘फ’ अनुसार है। प्रश्नाधीन अवधि में बैठकों का आयोजन किया गया है। अत: कार्यवाही का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
उप-स्वास्थ्य केन्द्र व 108 वाहन की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
122. ( क्र. 2835 ) श्री विष्णु खत्री : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र बैरसिया अंतर्गत परवलिया सड़क में उप-स्वास्थ्य केन्द्र का संचालन हो रहा है अथवा नहीं? इसी तरह यहां पर 108 एम्बुलेंस की व्यवस्था की गयी है अथवा नहीं? (ख) प्रश्नांश (क) यदि नहीं, तो विभाग द्वारा इतने बड़े क्षेत्र को चिकित्सा जैसी मूलभूत सुविधाओं से वंचित क्या रखा गया, क्या कारण है? (ग) परवलिया सड़क में थाना संचालित होने के साथ राष्ट्रीय राजमार्ग होने से आये दिन सड़क दुर्घटनाओं में घायल व्यक्ति को तत्काल चिकित्सकीय सहायता मिल सके, इस दिशा में विभाग द्वारा 108 एम्बुलेंस की व्यवस्था कब तक कर दी जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी नहीं। पूर्व में 108 एम्बुलेंस की व्यवस्था की गई थी परंतु एम्बुलेंस का समुचित उपयोग नहीं होने के कारण वाहन को वहाँ से हटा दिया गया है। (ख) विधानसभा क्षेत्र बैरसिया अंतर्गत परवलिया सड़क में उप-स्वास्थ्य केन्द्र स्वीकृत नहीं है। परवलिया सड़क क्षेत्र उप-स्वास्थ्य केन्द्र मुगालिया हाट के अंतर्गत आता है एवं परवलिया सड़क क्षेत्र से लगभग 03 से 04 किलोमीटर की दूरी पर उप-स्वास्थ्य केन्द्र तारारेवनिया, कुराना एवं सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, गांधीनगर लगभग 06 किलोमीटर की दूरी पर संचालित है। उक्त स्वास्थ्य केन्द्रों से हितग्राहियों को चिकित्सा सेवाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं। इसी प्रकार गांधीनगर लोकेशन, अहमदपुर एवं श्यामपुर लोकेशन पर स्थित 108 एम्बुलेंस द्वारा परवलिया सड़क क्षेत्र के नागरिकों को आवश्यकता पड़ने पर एम्बुलेंस सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। (ग) प्रश्न भाग (क) के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्वास्थ्य मिशन अंतर्गत किये गये कार्य
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
123. ( क्र. 2862 ) श्री संदीप श्री प्रसाद जायसवाल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष-2014-15 से प्रश्न दिनांक तक कटनी जिले को राष्ट्रीय-ग्रामीण एवं शहरी स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत कितनी राशि वर्षवार प्राप्त हुई एवं कितनी राशि किन-किन कार्यों में कब-कब व्यय की गई? (ख) प्रश्नांश (क) व्यय राशि की उपयोगिता का सत्यापन किन शासकीय सेवकों से कराये जाने के नियम/निर्देश है? कटनी जिले में प्रश्नाधीन अवधि में व्यय की गई राशि के सत्यापन से अवगत करायें? (ग) क्या कटनी जिले के विद्यालयों में निपी योजना के तहत वितरित होने वाली आयरन की गोलियों का वर्ष-2015 से वितरण नहीं हुआ है? यदि हाँ, तो इसके लिये कौन-कौन जिम्मेदार है? इन पर क्या कार्यवाही कब तक की जायेगी? (घ) राष्ट्रीय ग्रामीण एवं शहरी स्वास्थ्य मिशन की गतिविधियों एवं प्राप्त राशि के आवंटन/व्यय के क्या शासनादेश है और क्या इस संबंध में जनप्रतिनिधियों को भी अवगत कराने, शामिल करने एवं अनुमोदन कराये जाने के भी निर्देश है? यदि हाँ, तो किस प्रकार जानकारी देवें। (ड.) प्रश्नांश ''घ'' के तहत क्या प्रश्नांश (क) अवधि में कटनी जिले में राष्ट्रीय ग्रामीण एवं शहरी स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत संचालित गतिविधियों के संबंध में प्रश्नकर्ता सदस्य एवं अन्य माननीय जनप्रतिनिधियों को अवगत कराया गया एवं विचार-विमर्श किया गया है? यदि हाँ, तो किस प्रकार एवं कब-कब? यदि नहीं, तो क्यों? क्या शासन इस संबंध में कार्यवाही कर समुचित निर्देश जारी करेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) व्यय की गई राशि का सत्यापन ब्लॉक स्तर पर खण्ड चिकित्सा अधिकारी द्वारा तथा जिला स्तर पर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, सिविल सर्जन एवं सह-अस्पताल अधीक्षक एवं संबंधित कार्यक्रम अधिकारी से कराये जाने के निर्देश हैं। प्रश्नावधि में व्यय की गई राशि का सत्यापन उपरोक्तानुसार किया गया है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) जी हाँ। वित्तीय वर्ष हेतु जिले की स्वीकृत कार्ययोजना एवं राशि एन.एच.एम मध्यप्रदेश से मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को उपलब्ध करायी जाती है। स्वीकृत कार्ययोजना अनुसार जिला स्वास्थ्य समिति के अनुमोदन से मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा नियमानुसार व्यय किये जाने के दिशा-निर्देश हैं। जिले की कार्ययोजना एवं आवंटन-व्यय राशि का जिले की साधारण सभा के समक्ष प्रस्तुतीकरण किया जाता है। (ड.) जी हाँ। प्रश्नावधि में दिनांक 04.05.2015 को बैठक आयोजित की गयी थी। समय-समय पर नियमानुसार साधारण सभा की बैठक में जिले की कार्ययोजना व आवंटन-व्यय राशि को प्रस्तुत करने हेतु पुनः निर्देश जारी किए जा रहे हैं।
विद्यालय भवनों में निर्माण कार्य
[स्कूल शिक्षा]
124. ( क्र. 2863 ) श्री संदीप श्री प्रसाद जायसवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कटनी जिले में ग्रामीण क्षेत्रों के शासकीय विद्यालयों में निर्माण एवं मरम्मत कार्य हेतु वर्ष 2014-15 से किस-किस मद में कितनी-कितनी राशि, कब-कब प्राप्त हुई? वर्षवार बतायें। (ख) प्रश्नांश (क) के तहत प्राप्त राशि से, किन-किन विद्यालयों में कितनी-कितनी लागत से क्या-क्या कार्य कराये जाने की कब-कब स्वीकृति प्रदान की गई, राशि आवंटित की गई और क्या प्रश्न दिनांक तक उपरोक्त कार्य पूर्ण हो गये? यदि हाँ, तो विवरण बताये एवं कार्य पूर्णता प्रमाण-पत्र उपलब्ध करायें? यदि नहीं, तो क्यों? विद्यालयवार बतायें। (ग) प्रश्नांश (ख) के तहत आवंटित सम्पूर्ण राशि आहरित होने पर भी निर्माण कार्य अपूर्ण रहने पर क्या विभाग/शासन द्वारा संज्ञान लेते हुये, कार्यवाही की गई है? यदि हाँ, तो क्या? यदि नहीं, तो क्यों? कारण बतायें। (घ) प्रश्नांश (ग) के तहत कलेक्टर महोदय एवं मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत कटनी को दिसम्बर 2016 में ऑन-लाईन प्राप्त शिकायतों पर प्रश्न दिनांक तक की गई जाँच एवं कार्यवाही की जानकारी उपलब्ध करायें। (ड.) प्रश्नांश (क) से (घ) के तहत निर्माण कार्यों में अनियमितताओं और जाँच एवं कार्यवाही लंबित रखने पर क्या कार्यवाही कब तक की जायेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी विद्यालयों जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार। शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ-अनुसार। (ख) हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार। प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार। (ग) हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो में अंकित है। प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। निर्माण कार्यों की राशि आहरित होने पर भी निर्माण कार्य अपूर्ण रहने पर निर्माण एजेन्सी की वसूली की कार्यवाही प्रचलन में है। (घ) एवं (ड.) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
स्कूल को प्रदाय की गई सामग्री
[स्कूल शिक्षा]
125. ( क्र. 2870 ) श्री पुष्पेन्द्र नाथ पाठक : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2014 से प्रश्न दिनांक तक छतरपुर में टेलीविजन, मध्यान्ह भोजन हेतु गैस कनेक्शन एवं चूल्हा और अन्य बर्तन, कम्प्यूटर, ट्रांजिस्टर कितने विद्यालयों को प्रदाय किए गये? सूची उपलब्ध करायें। इन सामग्री के रख-रखाव और देखभाल हेतु किसकी जिम्मेदारी है। (ख) प्रश्नांश (क) के अनुक्रम में 31-12-2016 की स्थिति में अवगत करायें कि वितरित की गई सामग्री की भौतिक स्थिति क्या है? विद्यालयवार सूची स्पष्ट करें। (ग) प्रश्नांश (ख) के अनुक्रम में जो भी सामग्री भौतिक सत्यापन में प्राप्त नहीं हुई या खराब पाई गई, उसके लिए क्या प्रावधान है? इस हेतु क्या कार्यवाही की गई।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) से (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
जिले में संचालित छात्रावास एवं सुविधाएं
[स्कूल शिक्षा]
126. ( क्र. 2897 ) श्री जालम सिंह पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नरसिंहपुर जिले में कितने छात्रावास स्कू्ल शिक्षा विभाग द्वारा संचालित किए जा रहे हैं? अगर छात्रावास संचालित हैं, तो इसमें भोजन एवं सुविधाएं किस प्रकार प्रदान की जाती है? (ख) क्या छात्रावासों में वार्डन, केयर-टेकर छात्रावासों में रहना चाहिए? ऐसा नियम है, अगर कोई वार्डन नहीं रहता तो क्या कार्यवाही का प्रावधान है? (ग) छात्रावास में रहने के लिए छात्रों का चयन किस प्रक्रिया द्वारा किया जाता है? जिले में छात्रावासी छात्र-छात्राओं की कितनी संख्या है? (घ) कितने छात्रावास प्रायवेट भवनों एवं सरकारी भवनों में संचालित हो रहे है? स्थानवार जानकारी प्रदान करें? प्रायवेट छात्रावासों का चयन किस प्रक्रिया द्वारा कितने समय के लिए कितने-कितने किराये (रेटो) पर लिया गया है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) नरसिंहपुर जिले में सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत दो बालिका छात्रावास क्रमशः बालिका छात्रावास करेली एवं बालिका छात्रावास आमगांव छोटा संचालित है। इसी प्रकार सी.डब्ल्यू.एस.एन छात्रों हेतु एक बालक सी.डब्ल्यू.एस.एन छात्रावास संचालित है। बालिका छात्रावासों में प्रति माह प्रति बालिका 1500 रूपये भोजन एवं कुकिंग गैस हेतु प्रदाय की जाती है तथा बालिकाओं को छात्रावासों में सुविधा के अंतर्गत वृत्तिका, शैक्षिक सामग्री, निःशुल्क भोजन, व्यक्तिगत आवश्यकता की सामग्री तथा बिस्तर की राशि प्रदाय की जाती है। सी.डब्ल्यू.एस.एन छात्रावास में भोजन की राशि 900 रूपये प्रति छात्र प्रति माह के मान से प्रदाय की जाती है। सुविधा के अंतर्गत शैक्षिक सामग्री, व्यक्तिगत आवश्यकता व वृतिका की राशि प्रदाय की जाती है। (ख) बालिका छात्रावासों में सहायक वार्डन का पूर्णकालिक रूप से रहने का प्रावधान है। सहायक वार्डन की अनुपस्थिति में वार्डन को रहना अनिवार्य है। सी.डब्ल्यू.एस.एन छात्रावास में वार्डन एवं केयर गिवर रहना चाहिए। बालिका छात्रावासों में वार्डन की अनुपस्थिति की दशा में वार्डन को प्रभार से मुक्त किया जा सकता है। नरसिंहपुर के दिव्यांग छात्रावास में वार्डन की अनुपस्थिति की दशा में अनुबंधित स्वयं सेवी संस्था को नोटिस देने के पश्चात अनुबंध समाप्त किया जा सकता है। (ग) छात्रावास में प्रवेश हेतु बालिकाओं के चयन के लिए प्राथमिक शिक्षा के बाद शाला त्यागी एवं शाला अप्रवेशी बालिकाएं, अनाथ बालिकाएं अथवा एकल परिवार की बालिकाएं अथवा जिनके ग्राम में कोई माध्यमिक शाला नहीं है, को छात्रावास में प्रवेश दिया जाता है। जिले में छात्रावास में कुल 150 बालिकाएं निवासरत हैं। सी.डब्ल्यू.एस.एन छात्रावास में जिले के अंतर्गत चिन्हित शाला जाने योग्य सी.डब्ल्यू.एस.एन बच्चों को प्रवेश दिया जाता है। सी.डब्ल्यू.एस.एन छात्रावास में कुल 50 छात्र निवासरत है। (घ) तीनों छात्रावास शासकीय भवन में संचालित हैं। उपरोक्त बालिका छात्रावास करेली एवं आमगांव छोटा में संचालित है तथा सी.डब्ल्यू.एस.एन छात्रावास नरसिंहपुर में संचालित है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय चिकित्सालयों में मरीजों को नि:शुल्क दवाइयों का प्रदाय
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
127. ( क्र. 2898 ) श्री जालम सिंह पटेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में शासकीय चिकित्सालयों में मरीजों का नि:शुल्क दवाइयां, इंजेक्शन, दिये जाते हैं। इनमें से कौन-कौन सी दवाइयां, इंजेक्शन शासन स्तर से या स्थानीय स्तर पर क्रय किए जाने का प्रावधान है? (ख) क्या नि:शुल्क दवाइयां इंजेक्शन स्टॉक पंजी में दर्ज एवं उनकी संख्या के मान किया जाता है? (ग) यदि हाँ, तो क्या स्टॉक समाप्त होने के पहले दवाइयां क्रय की जानी चाहिए जिससे मरीजों को हमेशा दवाइयां प्राप्त होती रहें? (घ) जिला चिकित्सालय नरसिंहपुर में मरीजों को नि:शुल्क दवाइयां इंजेक्शन क्यों नहीं प्राप्त होते बाहर से मरीजों को क्रय करके क्यों लाना पड़ता है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) प्रदेश में शासकीय चिकित्सालयों में मरीजों को निःशुल्क जेनरिक दवाइयां, इंजेक्शन, न्यूनतम ई.डी एल. की सूची अनुसार दिये जाते हैं। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। म.प्र. पब्लिक हेल्थ कार्पोरेशन लि. द्वारा जिन औषधियों एवं इंजेक्शन की राज्य स्तर पर दर निर्धारित की जाती हैं। उनका क्रय राज्य स्तर पर निर्धारित दरों पर जिला स्तर से जो कि कुल बजट का 80 प्रतिशत है, किये जाने का प्रावधान है तथा जिन औषधियों की दरें म.प्र. पब्लिक हेल्थ सर्विस कार्पोरेशन लि. की दर सूची में नहीं होती है। उनका क्रय स्थानीय स्तर पर आमंत्रित निविदा की न्यूनतम दर पर जिला स्तर से किये जाने का प्रावधान है, यह कुल बजट का 20 प्रतिशत ही कर सकते हैं। (ख) जी हाँ। क्रय की जाने वाली एवं मरीजों को दी जाने वाली समस्त औषधियों को स्टॉक पंजी में इंद्राज किया जाता है। (ग) स्टॉक समाप्त होने के पूर्व ही तीन माह की आगामी आवश्यकता अनुसार औषधियों के क्रय आदेश जारी कर दिये जाते हैं। (घ) जिला चिकित्सालय नरसिंहपुर में मरीजों को निःशुल्क दवाइयां इंजेक्शन निर्धारित ई.डी.एल. की सूची अनुसार उपलब्ध कराई जाती हैं। किसी भी मरीज को बाहर से दवाइयां लाने हेतु बाध्य नहीं किया जाता है।
घोषणा का क्रियान्वयन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
128. ( क्र. 2908 ) श्री भंवर सिंह शेखावत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) माननीय मुख्यमंत्री महोदय द्वारा 28.02.2016 को कोटेश्वर (बदनावर) प्रवास के दोरान वर्ष 2016 में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बदनावर का सिविल हॉस्पिटल में उन्नयन की घोषणा की गई थी एवं तात्कालिक प्रभारी मंत्री एवं स्वास्थ्य मंत्री द्वारा 29.10.2015 को बदनावर में ग्राम कोद में नवीन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र खोलने एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र कानवन का सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में उन्नयन तथा बदनावर में सर्व सुविधायुक्त एम्बुलेंस प्रदाय करने की घोषणा की गई थी। (ख) उक्त घोषणाओं के परिपालन में कब तक बदनावर एवं कानवन हॉस्पिटल का उन्नयन किया जावेगा? कब तक नवीन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र कोद में खोलने की स्वीकृति तथा एम्बुलेंस प्राप्त होगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। जी हाँ। (ख) वर्तमान में दोनों स्वास्थ्य संस्थाओं का पूरा उपयोग नहीं होने से एवं प्रदेश में चिकित्सकों की निरन्तर कमी से इनका उन्नयन करने में कठिनाई है। विधायक निधि से सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, बदनावर में एम्बुलेन्स उपलब्ध है।
शासकीय चिकित्सक एवं चिकित्सा स्टॉफ की पद पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
129. ( क्र. 2909 ) श्री भंवर सिंह शेखावत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा क्षेत्र बदनावर के समस्त शासकीय चिकित्सालयों में चिकित्सक एवं चिकित्सा स्टॉफ की अत्यंत कमी है। कब तक पदपूर्ति की जावेगी? (ख) शासकीय चिकित्सालयों में चिकित्सीय संसाधन/उपकरणों की कमी हैं। कब तक आपूर्ति की जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी नहीं, चिकित्सक एवं स्टॉफ उपलब्ध है परंतु चिकित्सकों/स्टॉफ की कमी के कारण शत्-प्रतिशत पद पूर्ति नहीं है। विभाग रिक्त पद पूर्ति हेतु निरंतर प्रयासरत है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) शासकीय चिकित्सालय द्वारा प्रस्तुत मांग-पत्र अनुसार चिकित्सकीय संसाधन/उपकरण की आपूर्ति निरंतर की जा रही है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
हितग्राही मूलक व निर्माण कार्य
[आदिम जाति कल्याण]
130. ( क्र. 2932 ) श्रीमती संगीता चारेल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) आदिवासी विकास विभाग द्वारा कौन-कौन सी हितग्राही मूलक व निर्माण कार्य संबंधी योजनाएं सैलाना एवं बाजना जनपद में संचालित की जा रही हैं। इन योजनाओं का लाभ प्राप्त किए जाने के क्या मापदंड हैं। (ख) वर्ष २०१४-१५ से आज दिनांक तक सैलाना विधानसभा क्षेत्र में विभाग द्वारा कितने निर्माण कार्य स्वीकृत किए गए, मय लागत वर्षवार वित्तीय एवं भौतिक प्रगति की जानकारी प्रदान करें। क्या सभी स्वीकृत कार्य निर्धारित समय-सीमा में पूर्ण हो गये हैं? यदि नहीं, तो क्यों? इसके लिए कौन जिम्मेदार है? (ग) प्रश्न (ख) के सम्बंध में जो कार्य प्रशासकीय स्वीकृति से कम राशि में पूर्ण होकर सी.सी. जारी हो गई है। उनमें कितनी-कितनी अवशेष राशि शेष बची है? वर्षवार स्वीकृत राशि व्यय राशि तथा अवशेष राशि की जानकारी प्रदान करें तथा अवशेष राशि का उपयोग कहाँ व किस नियम से किया गया?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) संचालनालय, आदिम जाति क्षेत्रीय विकास योजनाएं द्वारा सैलाना एवं बाजना जनपद पंचायत में हितग्राही मूलक एवं निर्माण कार्य संबंधी आदिवासी उपयोजना विशेष केन्द्रीय सहायता, संविधान के अनुच्छेद 275 (1), अनुसूचित जनजाति विद्युतीकरण एवं पूल-फण्ड योजना संचालित है। योजनाओं के लाभ प्राप्त किये जाने के मापदण्ड पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''एक'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''दो'' अनुसार है। विशेष केन्द्रीय सहायता एवं विद्युतीकरण योजनान्तर्गत स्वीकृत कार्य पूर्ण हो चुके हैं। संविधान के अनुच्छेद 275 (1) अन्तर्गत स्वीकृत 32 कार्यों में से 09 कार्य पूर्ण हो गये हैं। 19 कार्य प्रगतिरत है। शेष 04 कार्यों में परियोजना प्रशासक, एकीकृत आदिवासी विकास परियोजना सैलाना जिला रतलाम के स्तर पर प्रशासकीय स्वीकृति जारी किये जाने की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। अपूर्ण सभी कार्य भी 31 मार्च 2017 की समय-सीमा में ग्राम पंचायतों के माध्यम से पूर्ण करा लिये जाएंगे। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) वर्षवार अवशेष राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''दो'' अनुसार है। अवशेष राशि रू. 45724/- का उपयोग नहीं किया गया है।
प्राथमिक, माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों का संचालन
[स्कूल शिक्षा]
131. ( क्र. 2933 ) श्रीमती संगीता चारेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा सैलाना विधानसभा क्षेत्र में कितने आवासीय कोर्स कहाँ-कहाँ संचालित किए जा रहे हैं? इनमें कितने कितने छात्र अध्यनरत हैं? इन्हें क्या क्या सुविधाएं उपलब्ध कराई जा रही हैं? (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में संचालित आवासीय कोर्स के अतिरिक्त क्या विभाग द्वारा सैलाना विधानसभा क्षेत्र में और भी स्थानों पर इस प्रकार की कक्षाएं प्रारंभ करने की कार्यवाही की जा रही है? यदि हाँ, तो इसके लिए क्या कार्यवाही की गई है? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) रतलाम जिले के सैलाना विधानसभा क्षेत्र में सर्व शिक्षा अभियान अंतर्गत 2016-17 में 08 से 14 आयुवर्ग तक के शाला त्यागी/शाला अप्रवेशी बच्चों को शिक्षा की मुख्य धारा से जोड़ने हेतु कुल 03 आवासीय विशेष प्रशिक्षण केन्द्र संचालित है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट पर है। (ख) जी नहीं।
परिशिष्ट - ''छब्बीस''
औषधीयुक्त मच्छरदानी का वितरण
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
132. ( क्र. 2939 ) श्रीमती नीना विक्रम वर्मा : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मलेरिया विभाग द्वारा मच्छरदानियों का वितरण किया जाता है? यदि हाँ, तो वितरण हेतु क्या मापदण्ड है तथा हितग्राहियों का चयन किस आधार किया जाता है? (ख) क्या केन्द्र सरकार द्वारा भी मलेरिया प्रभावित जिलों में वितरण हेतु मच्छरदानियाँ संभागीय स्वास्थ्य विभाग को उपलब्ध करवाई जाती है? यदि हाँ, तो नवम्बर 2016 में केन्द्र से कितनी मच्छरदानियाँ प्राप्त हुईं तथा वित्तीय वर्ष 2014-15 व 2015-16 में इन्दौर संभाग में कुल कितनी मच्छरदानी राज्य व केन्द्र से प्राप्त हुईं? (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में उक्त दो वित्तीय वर्ष में प्राप्त मच्छरदानियों में से इन्दौर संभाग में जिलेवार व मदवार कितनी-कितनी मच्छरदानियाँ वितरित की गई तथा कितनी मच्छरदानियाँ वितरण हेतु वेयर हाउस में रखी हुई हैं? (घ) क्या शेष रखी व इस वर्ष हेतु प्राप्त मच्छरदानियाँ कब तक वितरण की जाने की कार्य योजना है तथा क्या मच्छरदानियों के वितरण कार्यक्रम में जनप्रतिनिधियों को सम्मिलित किये जाने का प्रावधान है? यदि हाँ, तो धार जिले में अभी तक इस पर अमल क्यों नहीं किया गया?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। भारत शासन द्वारा प्राप्त होने पर उच्च जोखिम जिलों के चिन्हित उच्च जोखिम ग्रामों में जहाँ वार्षिक परजीवी इंसीडेंस (API) 5 से अधिक हों, ऐसे ग्रामों के सभी निवासियों को मच्छरदानियों का वितरण किया जाता है। (ख) जी नहीं। भारत शासन द्वारा माह नवम्बर 2016 में 13,70,000 नग (तेरह लाख सत्तर हजार) मच्छरदानियाँ प्रदाय की गई है। जिनका भण्डारण शासकीय वेयर हाउस इन्दौर में किया गया है। राज्य स्तर से कोई भी मच्छरदानियाँ प्रदाय नहीं की गई है। (ग) वित्तीय वर्ष 2014-15 व 2015-16 में भारत शासन या राज्य शासन स्तर से कोई भी मच्छरदानियाँ प्रदाय नहीं की गई, इन्दौर शासकीय वेयर हाउस में 13,70,000 नग मच्छरदानियाँ वितरण हेतु संग्रहित की गई है। (घ) वर्ष 2014-15 व 2015-16 में मच्छरदानियाँ प्रदाय नहीं होने के कारण वितरण का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। माह नवम्बर 2016 में प्रदायित मच्छरदानियों का वितरण आगामी संक्रमण काल के पूर्व किया जाना प्रस्तावित है। मच्छरदानियाँ ग्राम स्तर पर जन प्रतिनिधियों के माध्यम से वितरित किये जाने के निर्देश संचालनालय स्वास्थ्य सेवायें द्वारा दिनांक 28.10.2016 को दिये गए हैं।
शासकीय विद्यालयों में क्रीड़ा शिक्षक के रिक्त पद
[स्कूल शिक्षा]
133. ( क्र. 2948 ) श्री मुकेश पण्ड्या : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) उज्जैन जिले में कुल कितने शासकीय माध्यमिक, हाई स्कूल और हायर सेकेण्डरी विद्यालय हैं? (ख) इन शासकीय विद्यालयों में क्रीड़ा शिक्षक के कितने पद कब से रिक्त हैं? (ग) शासन द्वारा इन शासकीय विद्यालयों में क्रीड़ा शिक्षकों की नियुक्ति पिछले कितने वर्षों में नहीं की गई है? (घ) प्रश्नांश (क) वर्णित शासकीय विद्यालयों में कितने प्रशिक्षित योग शिक्षक (कम से कम एक वार्षिक योग पाठ्यक्रम उत्तीर्ण) उपलब्ध है? (ड.) प्रश्नांश (क) वर्णित कितने शासकीय विद्यालयों में खेल मैदान उपलबध है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) उज्जैन जिले में 730 माध्यमिक 92 हाई स्कूल 89 हायर सेकेण्डरी स्कूल संचालित हैं। (ख) माध्यमिक विद्यालयों तथा हाई स्कूलों में क्रीड़ा शिक्षक के पद स्वीकृत नहीं है। जिले में संचालित 55 उ.मा.वि. में क्रीड़ा शिक्षकों के पद रिक्त हैं। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ग) विभाग के आदेश दिनांक 28 जनवरी 1998 के अनुसार दिनांक 01.01.1998 से सहायक शिक्षकों, शिक्षकों एवं व्याख्याताओं के सीधी भर्ती के पदों पर नियुक्ति में रोक लगाई गई है। रिक्त पदों की पूर्ति संविदा भर्ती प्रक्रिया के माध्यम से किए जाने का प्रावधान है। वर्तमान में कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। (घ) योग शिक्षक उपलब्ध है। (ड.) उज्जैन जिले के 1322 माध्यमिक शालाओं एवं 126 हाई/हायर सेकेण्डरी स्कूलों में खेल मैदान उपलब्ध है।
दोषी प्राचार्य के विरूद्ध कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
134. ( क्र. 2956 ) श्रीमती शीला त्यागी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रीवा जिले के शा.उ.मा. विद्यालय शाहपुर तहसील सेमरिया में श्री राकेश वर्मा अतिथि शिक्षक वर्ग-2 में पदस्थ हैं। यदि हाँ, तो श्री वर्मा के अलावा अन्य कितने अतिथि शिक्षक 2013 से प्रश्न दिनांक तक सेवारत हैं? जातिवार, वर्गवार सूची देवें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में जिला शिक्षा अधिकारी रीवा का पत्र पृ.क्र./सतर्कता/2016-17/ 1448 दिनांक 30-12-2016 द्वारा श्री वर्मा के मानदेय भुगतान हेतु लिखा गया है यदि हाँ, तो क्या विद्यालय के प्राचार्य द्वारा मानदेय न भुगतान करने या अन्य वित्तीय अनियमितता की शिकायत प्राप्त पत्रों की जानकारी देवें। (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में अतिथि शिक्षकों के भुगतान न करने के लिए कौन दोषी है? बतायें। (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में दोषी प्राचार्य श्रीमती सरला के विरूद्ध कौन सी दण्डात्मक कार्यवाही और कब तक की जावेगी।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी नहीं। वर्तमान में श्री राकेश वर्मा कार्यरत नहीं है। शा.उ.मा.वि. शाहपुर वृत्त, जिला रीवा में वर्ष 2013 से सेवारत अतिथि शिक्षकों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। श्री वर्मा शासकीय उ.मा.वि. शाहपुर में अगस्त 2015 एवं सितम्बर 2015 तथा माध्यमिक विद्यालय शाहपुर में अक्टूबर 2015 से अप्रैल 2016 तक सेवारत रहे। (ख) एवं (ग) जी हाँ। प्रथम दृष्ट्या आहरण वितरण अधिकारी शाला संकुल प्राचार्य, शा.उ.मा.वि. हर्दी कपसा, जिला रीवा एवं प्राचार्य, शा.उ.मा.वि. शाहपुर वृत्त, जिला रीवा दोषी परिलक्षित होते हैं। (घ) श्रीमती सरला शर्मा, प्राचार्य शा.उ.मा.वि. शाहपुर वृत्त, जिला रीवा को दिनांक 19.2.17 एवं श्री रामयश मिश्रा, संकुल प्राचार्य, शा.उ.मा.वि. हर्दी कपसा, जिला रीवा को दिनांक 19.2.17 को कारण बताओ सूचना पत्र जारी किया गया है।
प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र का सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में उन्नयन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
135. ( क्र. 2957 ) श्रीमती शीला त्यागी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रीवा जिले में प्राथमिक स्वास्थ केन्द्र लालगांव का उन्नयन सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में करने के लिए पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती माया सिंह पटेल का पत्र क्र.-479 दिनांक 13-09-11 पत्र क्र.-105 दिनांक 23-05-12, वर्तमान खनिज उद्योग मंत्री द्वारा जन घोषणा की गई है पत्रों की प्रतियों के साथ बतायें। (ख) प्रश्नांश (क) यदि हाँ, तो क्या संचालक स्वास्थ्य सेवायें भोपाल के पत्र पृ.क्र./5/विकास/सेल-4/2011/575 दिनांक 20-10-2011 तथा पत्र पृ.क्र./5/विकास/सेल-4/2012/465 दिनांक 18-10-2012 द्वारा तकनीकी कठिनाईयों का होना बताया गया है, तो उन पत्रों की प्रतियां देवें। (ग) प्रश्नांश (ख) यदि हाँ, तो वर्तमान में क्या उक्त मापदण्ड को लालगांव स्वास्थ्य केन्द्र उन्नयन हेतु पूर्ण करता है यदि हाँ, तो आदेशों की प्रतियां देवें। (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र लालगांव को, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में कब तक उन्नयन कर दिया जावेगा।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ, संदर्भित पत्रों की छायाप्रतियां पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘’अ’’ अनुसार है। (ख) जी हाँ, संदर्भित पत्रों की छायाप्रतियां पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘’ब’’ अनुसार है। (ग) जी नहीं, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) प्रश्नांश (ग) के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
आयुष औषधालयों के संबंध में
[आयुष]
136. ( क्र. 2970 ) श्री सूबेदार सिंह रजौधा : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र जौरा में स्थित औषधालयों में वर्ष २०१५ से प्रश्न दिनांक तक कितने कितने रोगियों को कौन-कौन सी दवाएं वितरित की गई हैं? (ख) विभाग द्वारा वर्ष २०१५ से प्रश्न दिनांक तक कितने आयुष रोग नियंत्रण कार्यक्रम एवं रोग कल्याण शिविर एवं अन्य संबंधित शिविर विधानसभा क्षेत्र अंन्तर्गत कहाँ-कहाँ लगाये गये हैं? उक्त शिविरों में कौन-कौन आयुर्वेद चिकित्सकों ने परीक्षण किया एवं लाभान्वित मरीजों की संख्या सहित, जानकारी दी जावे? (ग) प्रश्नांश (क) के संबंध में मरीजों को दवाएं वितरण किया जाना दर्शाया है, उस औषधी का दर अनुसार कुल राशि क्या है एवं प्रश्नांश (ख) के संबध में शिविरों में विभाग द्वारा कितनी कितनी राशि व्यय की गई?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘अ’’ एवं ‘‘ब’’ अनुसार। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘स’’ अनुसार। (ग) राशि 1422156.00 रूपये की औषधियां प्रदाय की गई। शिविरों हेतु पृथक से राशि स्वीकृत नहीं की गई है।
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र परासिया को 100 बिस्तरों का अस्पताल बनाया जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
137. ( क्र. 3013 ) श्री सोहनलाल बाल्मीक : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या छिन्दवाड़ा जिले के प्रभारी मंत्री द्वारा दिनांक 02.01.2017 प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र परासिया में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र परासिया को 100 बिस्तरों के उन्नयन किए जाने हेतु आदेश जारी करते हुए लगभग 9.00 करोड़ रूपये की राशि खनिज मद से स्वीकृत करते हुए जल्द ही टेन्डर निकालकर काम शुरू करने की सार्वजनिक घोषणा की गई थी? (ख) उपरांत घोषणा के परिपालन में विभाग द्वारा सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र परासिया को 100 बिस्तरों के अस्पतालों के रूप में उन्नयन किया जायेगा या नहीं? अवगत करायें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) माननीय प्रभारी मंत्रीजी द्वारा दिनांक 02.01.2017 को विधानसभा क्षेत्र परासिया में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, परासिया को 100 बिस्तर में उन्नयन किये जाने की सार्वजनिक घोषणा की जानकारी स्वास्थ्य विभाग को नहीं है। म.प्र. खनिज प्रतिष्ठान के न्यास मंडल तथा कार्यपालिक समिति जिला छिन्दवाड़ा की बैठक दिनांक 30.11.16 का कार्यवाही विवरण कार्यालय कलेक्टर (खनिज शाखा) जिला छिन्दवाड़ा के पत्र क्र.02/खनि./2017 दि0 02.01.17 के द्वारा मान. प्रभारी मंत्री द्वारा सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, परासिया को 30 बिस्तर से 100 बिस्तरों में उन्नयन के लिए अनुमानित लागत 9 करोड़ 50 लाख की राशि प्रतिष्ठान मद से कराये जाने का निर्णय लिया गया है। उक्त बैठक का कार्यवाही विवरण संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) विषयांतर्गत में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, छिन्दवाड़ा से अभिमत टीप प्राप्त कर नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी।
शासकीय स्कूलों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
138. ( क्र. 3014 ) श्री सोहनलाल बाल्मीक : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) परासिया विधान सभा क्षेत्रांतर्गत ऐसे कितने शासकीय प्राथमिक, माध्यमिक, हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल हैं, जो भवन विहीन, किराये के भवनों व जर्जर भवनों में संचालित हो रहे हैं? (ख) प्रश्नांश (क) के अनुसार उक्त भवन विहीन, किराये के भवनों व जर्जर भवनों में संचालित स्कूलों के नवीन भवन निर्माण हेतु शासन की क्या नीति है? (ग) परासिया विधान सभा क्षेत्रांतर्गत ऐसे कितने शासकीय प्राथमिक, माध्यमिक, हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी शाला भवन हैं, जिनमें बाउण्ड्रीवॉल नहीं हैं? जिन शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल नहीं हैं, ऐसी शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल निर्माण की शासन की क्या योजना है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) भवन विहीन शालाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। किराया व जर्जर भवनों में संचालित हो रहे विद्यालयों की जानकारी निरंक है। (ख) हाई स्कूल व हायर सेकेण्डरी विद्यालयों के शाला भवन का निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर है। प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों में जिले की वार्षिक कार्य योजना में भारत शासन से अनुमोदन पश्चात नवीन भवनों का निर्माण कराया जाता है। (ग) हाई स्कूल व हायर सेकेण्डरी विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। बाउण्ड्रीवॉल का निर्माण बजट पर निर्भर करेगा। 194 शासकीय प्राथमिक एवं 76 माध्यमिक शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल नहीं है। जिले की वार्षिक कार्य योजना वर्ष 2017-18 में भारत शासन से अनुमोदन प्राप्त करने हेतु प्रस्ताव शामिल किया गया है। स्वीकृति पश्चात निर्माण कराया जा सकेगा। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार।
अध्यापक संवर्ग की स्थानांतरण नीति
[स्कूल शिक्षा]
139. ( क्र. 3022 ) श्री आर.डी. प्रजापति : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अध्यापक संवर्ग की स्थानांतरण नीति शासन कब तक जारी करेगा? (ख) महिलाओं एवं दिव्यांगों की स्थानांतरण नीति क्या आवश्यक नहीं है? (ग) जिन महिलाओं के पति भी शासकीय सेवा में है पति पत्नी समायोजन के तहत स्थानातंरण नीति जारी कब तक की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) अध्यापक संवर्ग की स्थानांतरण नीति जारी नहीं की जाती है। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) प्रश्नांश (क) के उत्तर अनुसार प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
हमीदिया चिकित्सालय में फार्मासिस्ट के पद
[चिकित्सा शिक्षा]
140. ( क्र. 3026 ) श्री चम्पालाल देवड़ा : क्या राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) गांधी चिकित्सा महाविद्यालय से सम्बद्ध हमीदिया चिकित्सालय में फार्मासिस्ट के कुल कितने पद स्वीकृत हैं? इनमें कितने पद रिक्त हैं? (ख) क्या हमीदिया चिकित्सालय के केन्द्रीय औषधि भण्डार में रजिस्टर्ड फार्मासिस्ट नहीं है? यदि हैं तो उनका रजिस्टर्ड नंबर दें? (ग) प्रश्नांश (ख) में रजिस्टर्ड फर्मासिस्ट नहीं है तो शासन के नियमों के विरूद्ध नॉन क्वालिफाईड फार्मासिस्ट से किन अधिकारियों के निर्देश पर काम कराया जा रहा है? (घ) क्या शासन ऐसे व्यक्तियों को हटाकर रजिस्टर्ड फार्मासिस्ट से ही कार्य कराने की कार्यवाही करेगा?
राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा ( एडवोकेट शरद जैन ) : (क) गांधी चिकित्सा महाविद्यालय से सम्बद्ध हमीदिया चिकित्सालय में फार्मासिस्ट के 29 पद स्वीकृत हैं। इनमें से 13 पद रिक्त है। (ख) जी नहीं। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) औषधि भण्डार में कार्यरत 07 फार्मासिस्टों में से 04 फार्मासिस्ट रजिस्टर्ड हैं। 01 फार्मासिस्ट ड्रेसर पद से पदोन्नत हुआ है। शेष 02 फार्मासिस्ट माननीय उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा पारित स्थगन आदेश अनुसार कार्यरत हैं। प्रकरण माननीय उच्च न्यायालय में विचाराधीन हैं। (घ) उत्तरांश ‘‘ग’’ के परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्कूलों से उर्दू विषय समाप्त किया जाना
[स्कूल शिक्षा]
141. ( क्र. 3027 ) श्री आरिफ अकील : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वर्ष 2011 में शिक्षक शिक्षा के नवीन सेटअप में प्रत्येक जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान तथा आई.ए.एस.ई. से उर्दू व्याख्याताओं के पद समाप्त किए गए है? यदि हाँ, तो इन संस्थाओं में आने वाले प्रशिक्षणार्थियों के लिए उर्दू भाषा के शिक्षण एवं प्रशिक्षण की क्या व्यवस्था है? (ख) क्या उर्दू व्याख्याता/शिक्षकों को ऐसे स्थानों पर पदस्थ किया गया है जहाँ उर्दू विषय पढ़ने वाले छात्रों की कमी है और जहाँ उर्दू विषय पढ़ने वाले छात्रों की अधिकता है? वहां पर उर्दू विषय के व्याख्याता/शिक्षकों को पदस्थ नहीं किया गया या पदस्थ थे, तो स्थानान्तरित कर दिया गया? यदि नहीं, तो जहाँ-जहाँ उर्दू व्याख्याता/शिक्षक पदस्थ हैं, वहां पर उर्दू विषय के कुल कितने-कितने छात्र हैं और जहाँ पर उर्दू व्याख्याता/शिक्षक पदस्थ नहीं है वहां पर मुस्लिम छात्रों की संख्या भोपाल संभाग, इंदौर संभाग, उज्जैन संभाग, होशंगाबाद संभाग के जिलेवार, तहसीलवार स्कूलवार बतावें? (घ) प्रश्नांश (क), (ख) के परिप्रेक्ष्य में क्या मध्यप्रदेश में प्रारंभिक शिक्षा में उर्दू भाषा के शिक्षण प्रशिक्षण तथा अन्य अकादमिक गतिविधियों में उर्दू भाषा को समान स्थान क्यों नहीं दिया जा रहा है? यदि नहीं, तो प्रश्नांश (क) व (ख) में उल्लेखित कार्यवाही करने के क्या कारण तथा इस प्रकार के कृत्य से उर्दू भाषा के विकास में बाधा उत्पन्न नहीं होगी? यदि नहीं, तो वर्ष 2011 के नवीन सेटअप से उर्दू व्याख्याताओं/शिक्षकों को समाप्त करने के क्या कारण है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी, हाँ। इन प्रशिक्षण संस्थाओं में आने वाले प्रशिक्षणार्थियों के लिए उर्दू भाषा प्रशिक्षण आवश्यकतानुसार राज्य स्त्रोत समूह एवं जिला स्त्रोत समूह के माध्यम से किया जाता है। (ख) जानकारी एकत्रित की जा रही है। (घ) शिक्षण प्रशिक्षण संस्थाओं के लिये वर्ष 2011 में अस्तित्व में आए सेवा भर्ती नियमों को मानव संसाधन विकास मंत्रालय भारत सरकार की गाईड-लाईन के अनुरूप बनाया गया है। इनमें राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद् में उर्दू व्याख्याता एवं वरिष्ठ व्याख्याता के 01-01 पद स्वीकृत है। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
फर्नीचर, पीने के पानी तथा शौचालय की व्यवस्था
[स्कूल शिक्षा]
142. ( क्र. 3028 ) श्री आरिफ अकील : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भोपाल जिले में कई प्राथमिक विद्यालय, माध्यमिक विद्यालय, हाई स्कूल तथा हायर सेकेण्डरी स्कूल ऐसे हैं, जहाँ छात्रों के बैठने हेतु फर्नीचर, पीने के पानी तथा शौचालय की कोई व्यवस्था नहीं है? (ख) यदि हाँ, तो किस-किस नगर/वार्ड व ग्राम पंचायत स्तर पर कौन-कौन से स्कूलों में छात्रों के बैठने हेतु फर्नीचर, पीने के पानी तथा शौचालय की व्यवस्था नहीं है? (ग) प्रश्नांश (क), (ख) के परिप्रेक्ष्य में शासन के निर्देशानुसार स्कूलों में छात्रों के बैठने हेतु फर्नीचर, पीने का पानी तथा शौचालयों की व्यवस्था उपलब्ध कराने हेतु स्कूल प्रबंधन द्वारा प्रश्न दिनांक की स्थिति में क्या-क्या कार्यवाही की गई और यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) भोपाल जिले के सभी विद्यालयों में पीने के पानी तथा शौचालय की व्यवस्था है किन्तु 26 हाई स्कूलों तथा 383 प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों में फर्नीचर उपलब्ध नहीं है। (ख) प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों से संबंधित जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'अ' अनुसार है तथा हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी विद्यालयों से संबंधित जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'ब' अनुसार है (ग) सीमित वित्तीय संसाधनों के कारण सभी विद्यालयों में फर्नीचर की व्यवस्था नहीं की जा सकी।
शासकीय अस्पतालों में मृत गर्भवती महिलाओं एवं बच्चों की संख्या
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
143. ( क्र. 3074 ) श्री जितू पटवारी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) इंदौर जिले व रीवा में रेडियोलॉजिस्ट के कितने पद स्वीकृत है व कितने डॉक्टर वास्तविकता में कार्यरत है नाम व पदस्थापना अस्पताल सहित जानकारी देवें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार 01/01/2016 से 01/01/2017 तक कितनी महिलाओं की डिलेवरी जिला अस्पताल इंदौर व संजय गांधी अस्पताल रीवा में हुई व उनमें से कितनी महिलाओं और बच्चों की मौत हुई जानकारी देवें एवं अस्पताल प्रबंधन के कारण हुई? मौतों का जिम्मेदार कौन है और मृतक के परिवार को मुआवजा देने के क्या प्रावधान है? (ग) हर गर्भवती महिला की चिकित्सा नियमों अनुसार कितनी बार सोनोग्राफी होना आवश्यक है व प्रश्नांश (क) अनुसार उल्लेखित जिलों एवं अस्पताल में कितनी बार सोनोग्राफी वास्तविकता में किया जा रहा है? क्या यह सत्य है कि गर्भवती महिलाओं की हर ट्राईमेस्टर में एक सोनोग्राफी होना चाहिए पर औसतन प्रतीक्षा सूची दो से तीन माह की चलने के कारण उनकी सोनोग्राफी नहीं हो पा रही, जिसका कारण जच्चा व बच्चा दोनों पर गंभीर खतरा बना रहता है? (घ) प्रश्नांश (ख) अनुसार अवधि के प्रत्येक माह कितने-कितने केस जिला चिकित्सालय इंदौर व संजय गांधी अस्पताल रीवा से मेडिकल कॉलेजों को रेफर किये किये जानकारी टेबलवार देवें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-’’ब’’ अनुसार है। चिकित्सालयों में पदस्थ स्टॉफ द्वारा यथासंभव बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं प्रदान की जाती हैं। मृतक परिवार को मुआवजा देने का प्रावधान नहीं है परंतु यदि प्रकरण मानव अधिकार आयोग में दर्ज होता है, तो मानव अधिकार आयोग द्वारा की गई अनुशंसा अनुसार मुआवजा राशि विभाग द्वारा दी जाती है। (ग) भारत सरकार द्वारा वर्ष 2016 में जारी दिशा-निर्देशों के आधार पर गर्भावस्था के 18 से 19 सप्ताह के मध्य एक सोनोग्राफी की जानी है। चिकित्सालयों द्वारा महिला की स्वास्थ्य संबंधी परेशानियों के दृष्टिगत आवश्यतानुसार एक से अधिक बार सोनोग्राफी की जा सकती है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-’’स’’ अनुसार है।
प्रदेश में डॉक्टरों एवं स्टॉफ की बढ़ती कमी
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
144. ( क्र. 3075 ) श्री जितू पटवारी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश में भारतीय चिकित्सा मानक (I.H.S.) के अनुसार कितनी जनसंख्या पर कितने डॉक्टर, विशेषज्ञ, टेक्निशियन व नर्सिंग स्टॉफ की आवश्यकता होती है? नियमों की कॉपी सहित जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) बतायें कि प्रदेश में कुल कितने पद डॉक्टरों के स्वीकृत हैं व कितने वास्तविकता में भरे हुए हैं? (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार ही प्रदेश में विशेषज्ञों के कितने पद स्वीकृत, कितने भरे हुए एवं कितने वास्तविक में भरे हुए हैं? (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में प्रदेश में वर्तमान में कितने डॉक्टरों द्वारा इस वर्ष सेवानिवृत्ति हेतु आवेदन दिया गया है। कितने डॉक्टर 2 माह एवं उससे ज्यादा समय से अनाधिकृत रूप से छुट्टी पर गये हुए हैं? (ड.) प्रश्नांश (घ) अंतर्गत कितने डॉक्टर दूसरे विभागों में पदस्थापना के अंतर्गत कार्यरत हैं? विभागवार और डॉक्टरवार जानकारी देवें। (च) प्रदेश में खुल रहे नए मेडिकल कॉलेजों में कितने-कितने डॉक्टरों की जरूरत होगी? कॉलेजवार जानकारी उपलब्ध करायें। पद भरने हेतु शासन ने क्या योजना बनाई है।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) से (च) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
नवीन छात्रावास खोलने की कार्यवाही
[आदिम जाति कल्याण]
145. ( क्र. 3087 ) कुँवर सौरभ सिंह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या अनुसूचित जनजाति एवं अनुसूचित जाति वर्ग के छात्रों हेतु आदिम जाति कल्याण द्वारा नवीन छात्रावास खोले जाने का प्रावधान है? (ख) यदि हाँ, तो कटनी जिले (आदिम जाति कल्याण) द्वारा नवीन छात्रावास खोलने हेतु आदिम जाति कल्याण विभाग कटनी के 539, दिनांक 08.07.2015 के माध्यम आयुक्त आदिवासी विकास, म.प्र. भोपाल को प्रस्ताव प्रेषित किया गया? यदि हाँ, तो उक्त प्रस्ताव में अभी तक क्या कार्यवाही की गई? तिथिवार बताएं? (ग) प्रश्नकर्ता सदस्य द्वारा विषयांकित संदर्भ में विभाग को लिखे गये पत्र क्रमांक 1243, दिनांक 26.06.2015, पत्र क्रमांक 1310, दिनांक 02.07.2015, पत्र क्रमांक 74, दिनांक 12.04.2016 एवं पत्र क्रमांक 1840, दिनांक 02.01.2017 में कब-कब किस स्तर पर (जिला/राज्य) क्या कार्यवाही की गई? तिथिवार कार्यवाही विवरण दें? (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) के परिप्रेक्ष्य कटनी जिले की विधानसभा क्षेत्र बहोरीबंद में अनुसूचित जनजाति एवं अनुसूचित जाति वर्ग के छात्रों हेतु आदिम जाति कल्याण द्वारा नवीन छात्रावास खोले जावेंगे? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। प्रस्ताव पर की गई कार्यवाही की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) प्रस्ताव पर की गई कार्यवाही की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) शासन की निर्धारित नीति अनुसार नवीन छात्रावास खोले जाते हैं।
वेतन में एकरूपता
[स्कूल शिक्षा]
146. ( क्र. 3088 ) कुँवर सौरभ सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नोत्तरी दिनांक 09.12.2016 में मुद्रित अता. प्रश्न संख्या 130 (क्रमांक 1846) के तारतम्य में मण्डल कार्यपालिका समिति के निर्णय अनुसार संविदा डॉटा एन्ट्री ऑपरेटर की सेवा शर्तें एवं वेतनमान के संबंध में परीक्षण हेतु मण्डल स्तर में गठित समिति के आदेश की प्रति उपलब्ध करावें? साथ ही उक्त समिति की कब-कब बैठके हुई? उक्त बैठकों में क्या निर्णय लिये गये? निर्णय की प्रति उपलब्ध करावें। उक्त समिति द्वारा प्रकरण में क्या-क्या परीक्षण किया गया? परीक्षण प्रतिवेदन की प्रति दें। (ख) प्रश्नकर्ता सदस्य के पत्र क्रमांक 2115 दिनांक 21.01.2017 जो राज्यमंत्री जी एवं सचिव को लिखा गया? उस पर क्या कार्यवाही की गई? माननीय राजमंत्री जी का पत्र क्रमांक प्रशा./स्था./ए-2/1939/2016 भोपाल दिनांक 12.09.2016 से जो अवगत कराया गया? उसकी एक प्रति उपलब्ध करावें? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के परिप्रेक्ष्य में कब तक कार्यवाही पूर्ण कर ली जावेगी? अब तक न करने के क्या कारण है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) मण्डल कार्यपालिका समिति की बैठक दिनांक 28 सितम्बर 2016 के विषय क्रमांक 22 के निर्णय के क्रम में मण्डल मुख्यालय व संभागीय कार्यालय में नियोजित अन्य संविदा डॉटा एन्ट्री ऑपरेटर की सेवा शर्तें व वेतनमान के संबंध में समग्र परीक्षण हेतु मण्डल स्तर पर कार्यालयीन आदेश क्रमांक/प्रशा./स्था./ए-2/-2815-16 दिनांक 30.11.2016 द्वारा गठित समिति के आदेश जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। वर्तमान में प्रकरण के संबंध में अभी समिति की बैठक नहीं हो पायी है। समिति बैठक सम्पन्न होने के पश्चात परीक्षण उपरांत प्रतिवेदन की प्रति दी जा सकेगी। (ख) ‘‘ख‘‘ संबंध में प्रश्नकर्ता सदस्य के पत्र क्रमांक 2115 दिनांक 21.01.2017 जो माननीय राज्य मंत्री जी से जानकारी चाही गई थी व प्रतिलिपि मण्डल कार्यालय को सूचनार्थ एवं आवश्यक कार्यवाही हेतु भेजा गया था। अतः प्रकरण के संबंध में कार्यवाही प्रचलन में है एवं माननीय राज्यमंत्री को पत्र क्रमांक आदेश क्रमांक/प्रशा./स्था./ए-2/1939 भोपाल, दिनांक 12.09.2016 से अवगत कराये गये पत्र जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के परिप्रेक्ष्य में बोर्ड परीक्षा समाप्ति उपरांत समिति की बैठक आहूत की जाकर नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी। परीक्षा संबंधी महत्वपूर्ण कार्यों एवं आवश्यक तैयारियों में व्यस्त होने के कारण कार्यवाही नहीं की जा सकी।
अस्पताल का उन्नयन एवं स्वीकृति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
147. ( क्र. 3099 ) श्री यादवेन्द्र सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सतना जिले के उचेहरा विकासखण्ड के अंतर्गत अटरा सर्किल के पास उप-प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र स्थापित किये जाने हेतु शासन द्वारा कोई कार्ययोजना तैयार की गई है? यदि हाँ, तो क्या? यदि नहीं, तो कब तक की जाएगी? (ख) नागौद विधान सभा क्षेत्र के अंतर्गत नागौद अस्पताल वर्ष 1993 में 30 बेड का स्वीकृत किया गया था। वर्ष 1993 के बाद वर्ष 2017 तक में नागौद क्षेत्र की आबादी काफी बढ़ने के बाद भी नागौद अस्पताल को 100 बिस्तर का उन्नयन नहीं किया गया, जिससे क्षेत्र क नागरिकों को सतना जाना पड़ता है। क्या शासन नागौद अस्पताल को 100 बिस्तर का किया जाएगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) क्या प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में शासन द्वारा आयुर्वेद/होम्योपैथी/एलोपैथी/जो भी संभव हो अटरा में उप-प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र स्वीकृत किया जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) सतना जिले के उचेहरा विकास खण्ड अंतर्गत ग्राम अटरा में पूर्व से उप-स्वास्थ्य केन्द्र स्वीकृत है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी हाँ। जी हाँ। जी नहीं। नागौद अस्पताल को उन्नयन की पात्रता नहीं होने से। (ग) प्रश्नांश (क) के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
गुणवत्ताहीन सड़क निर्माण कार्यों की जाँच एवं दोषियों के विरूत्र कार्यवाही
[आदिम जाति कल्याण]
148. ( क्र. 3125 ) पं. रमेश दुबे : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता के परि.अता. प्रश्न क्रमांक 1803 दिनांक 9/12/2016 के उत्तर में विकासखण्ड चौरई के आदिवासी बालक छात्रावास झिलमिली एवं छात्रावास हरदुआमाल पहुँच मार्ग तक सी.सी. सड़क का निर्माण 6-7 माह में क्षतिग्रस्त होने की कलेक्टर द्वारा जाँच कराये जाने के निर्देश दिये गये हैं? (ख) क्या प्रश्नकर्ता के प्रश्न के पश्चात् उक्त सड़क का पुनर्निमाण कराये जाने का मामला प्रकाश में आया है, जिसकी खबर स्थानीय समाचार पत्रों में निर्माणधीन सड़क की छायाप्रति सहित समाचार प्रकाशित हुआ था? (ग) यदि हाँ, तो प्रश्नकर्ता के प्रश्न के पश्चात् उक्त दोनों सड़कों के पुनर्निमाण की आवश्यकता क्यों पड़ी? क्या पूर्व में गुणवत्ताहीन निर्माण हुआ था? इस सड़क निर्माण के इंजीनियर का नाम, पता एवं ठेकेदार का नाम, पता की जानकारी देते हुए यह बतावें कि गुणवत्ताहीन सड़क निर्माण करने और कराने वालों के विरूद्ध शासन ने क्या कार्यवाही की और नहीं की तो क्यों? (घ) क्या शासन उक्त तथ्य को प्रश्नकर्ता के उपस्थिति में जाँच करवाकर गुणवत्ताहीन सड़क निर्माण करने वाले ठेकेदार और निर्माण कराने वाले इंजीनियर्स के विरूद्ध कार्यवाही एवं स्थानीय थाना में प्राथमिकी दर्ज कराने का आदेश देगा? नहीं तो क्यों?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) पुनर्निमाण नहीं कराया गया है। रोड निर्माण के तुरन्त बाद ग्रामवासियों द्वारा रोड में बाजार लगने वाहन एवं बैलगाड़ी चलाये जाने के कारण सी.सी.रोड क्षतिग्रस्त हो जाने से आवश्यकतानुसार सुधार कार्य कराया गया है। सड़क निर्माण का कार्य श्री आर.ए.त्रिपाठी, उपयंत्री, आदिवासी विकास, छिन्दवाड़ा एवं ठेकेदार, आदित्य इंटरप्राईजेस, भोपाल के द्वारा किया गया है। चूँकि सड़क का निर्माण कार्य गुणवत्ताहीन नहीं हुआ है। अत: अनुशासनात्मक कार्यवाही का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) उक्त सी.सी. सड़क का निर्माण कार्य गुणवत्ताहीन नहीं था। अत: ठेकेदार एवं निर्माण कराये जाने वाले इंजीनियर के विरूद्ध कार्यवाही एवं स्थानीय थाने में एफ.आई.आर. दर्ज नहीं कराई गई है।
खम्भों में विद्युत तार लगाया जाना
[आदिम जाति कल्याण]
149. ( क्र. 3126 ) पं. रमेश दुबे : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधान सभा क्षेत्र चौरई में आदिम जाति कल्याण विकास विभाग द्वारा विगत 3 वर्षों में किन-किन ग्रामों में विद्युत कार्यों हेत कितनी-कितनी राशि वर्षवार स्वीकृत की गयी? कार्य की अवधि क्या थी? राशि निर्माण एजेंसी को कब उपलब्ध करायी गयी? कार्य कब प्रारंभ हुआ, कब पूर्ण होना था? (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में क्या स्वीकृत सभी कार्य पूर्ण होकर विद्युत सुविधाएं उपलब्ध करा दी गयी है, यदि नहीं, तो कौन-कौन से कार्य अभी तक अधूरें हैं? अपूर्णता के कारण स्पष्ट करते हुए बतायें कि यदि ठेकेदारों द्वारा समय पर कार्यपूर्ण नहीं कि गये तो विभाग के द्वारा क्या कार्यवाही की गयी? नहीं, की गयी तो क्यों? (ग) क्या प्रश्नकर्ता ने विकासखण्ड विछुआ जिला छिन्दवाड़ा के वनग्राम कुर्सीपार में विगत एक वर्ष से गड़ाये गये विद्युत पोल्स पर तार लगाकर ग्रामीणों को विद्युत सुविधायें उपलब्ध कराये जाने हेतु पत्र क्रमांक 1880, दिनांक 17.12.2016 सहायक आयुक्त आदिवासी विकास छिन्दवाड़ा को एवं एक पत्र माननीय आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय को प्रस्तुत किया है? (घ) यदि हाँ, तो इस पत्रों पर अब तक क्या कार्यवाही की गयी है? कब तक वनग्राम कुर्सीपार में गड़ाये गये? विद्युत खम्भों पर विद्युत तार लगाकर ग्रामवासियों को विद्युत सुविधा उपलब्ध करा दिया जावेगा? लम्बे समय से तार न लगाने के लिये कौन लोग जिम्मेदार हैं? शासन उनके विरूद्ध क्या कार्यवाही करेगा?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) सभी कार्य पूर्ण होकर हितग्राहियों को विद्युत सुविधा उपलब्ध करा दी गई है, कोई कार्य अपूर्ण नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। (घ) ग्राम कुर्सीपार में पूर्व से गड़ाये गये अतिरिक्त विद्युत खंभों में संबंधित ठेकेदार से विद्युत तार संयोजित कराया जाकर ग्रामवासियों को विद्युत सुविधा उपलब्ध करा दी गई है। कार्यवाही का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
विद्युतीकरण कार्य में अनियमितता
[आदिम जाति कल्याण]
150. ( क्र. 3141 ) कुमारी निर्मला भूरिया : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पेटलावद विधान सभा क्षेत्र में वर्ष 2011-12, 2012-13, एवं 2013-14 में ग्रामीण विद्युतीकरण मद अंतर्गत किन-किन ग्रामों/मजरे/टोलों में विद्युतीकरण तथा एक बत्ती कनेक्शन कार्य कितनी-कितनी लागत के किये गये विकासखण्डवार जानकारी देवें? (ख) उक्त कार्य किन-किन ठेकेदार द्वारा करवाया गया तथा उन्हें कितनी-कितनी राशि का भुगतान वर्षवार किया गया? क्या भुगतान पूर्व विद्युत विभाग द्वारा भौतिक सत्यापन किया गया था? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार करवाये गये विद्युतीकरण कार्य एवं एक बत्ती कार्य में आज दिनांक तक मीटर शत्-प्रतिशत कनेक्शनों में मीटर नहीं लगाये और न ही मजरे टोलों में विद्युत प्रदाय किया जा रहा है। यदि हाँ, तो इसके लिए कौन जिम्मेदार है? (घ) विद्युतीकरण कार्य में की गई अनियमितता के लिए जिम्मेदार अधिकारी/कर्मचारी/ठेकेदार पर क्या कार्यवाही की गई है? यदि नहीं, तो कब तक की जावेगी?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) पेटलावद विधानसभा क्षेत्र में वर्ष 2011-12, वर्ष 2012-13 एवं वर्ष 2013-14 में अनुसूचित जनजाति विद्युतीकरण योजना मद में कराये गये कार्यों तथा कार्यों की लागत सहित ग्रामवार तथा विकासखंडवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) ठेकेदार एवं उसको भुगतान की गई राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। कराये गये कार्यों की राशि का भुगतान करने के पूर्व विद्युत विभाग द्वारा भौतिक सत्यापन किया गया है। (ग) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में, कराये गये कार्यों के संबंध में इस प्रकार की कोई शिकायत प्राप्त होना नहीं पाया गया है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) प्रश्नांश (ग) के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
बेरोजगार युवक-युवतियों को रोजगार
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
151. ( क्र. 3142 ) कुमारी निर्मला भूरिया : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) झाबुआ जिले में पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक वर्ग के शिक्षित बेरोजगार युवक-युवतियों को रोजगार हेतु प्रशिक्षण दिये जाने के लिए कौन-कौन सी योजनाएं संचालित है? (ख) क्या जिले में इन योजनाओं के तहत वर्ष 2015-16, 16-17 में प्रशिक्षण दिया गया? यदि हाँ, तो कहाँ-कहाँ, कितने परीक्षणार्थी को प्रशिक्षण दिया गया? प्रशिक्षण उपरान्त युवक-युवतियाँ क्या-क्या रोजगार कर रहे है? (ग) विभाग को वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में उक्त योजना हेतु कितनी-कितनी राशि प्राप्त हुई तथा विभाग द्वारा कितनी राशि कहाँ व्यय की है?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) झाबुआ जिले में पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक वर्ग के शिक्षित बेरोजगार युवक-युवतियों को रोजगार प्रशिक्षण दिए जाने हेतु ''रोजगार एव कौशल विकास योजना'' के नाम से केवल एक ही योजना संचालित है। (ख) जी हाँ, योजना अंतर्गत वर्ष 20415-16 में झाबुआ जिले में पेटलावद में 30 एवं झाबुआ में 30 इस प्रकार कुल 60 प्रशिक्षणार्थियों को प्रशिक्षण दिया गया। प्रशिक्षण उपरांत युवक-युवतियों कम्प्यूटर ऑपरेटर, टीचिंग, अकाउंटिंग, डॉटा इंट्री, रिसेप्शनिस्ट कम्प्यूटर ऑपरेटर, टीचर्स, अकाउंटिंग, क्लर्क, लेखापाल इत्यादि रोजगार कर रहे है। इसी प्रकार वर्ष 2016-17 में केवल झाबुआ में 30 प्रशिक्षणार्थियों को प्रशिक्षण दिय गया। उनके असेसमेंट एवं रोजगार देने की कार्यवाही वर्तमान में प्रचलन में है। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
परिशिष्ट - ''पैंतीस''
दवाओं एवं उपकरणों की खरीदी
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
152. ( क्र. 3165 ) श्री हर्ष यादव : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में प्रश्न दिनांक तक सागर जिले के सामुदायिक प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों को कितनी राशि के कौन से चिकित्सा उपकरण प्रदान किये गये? अस्पताल स्थानवार बतायें। (ख) प्रश्नांश (क) उल्लेखित अवधि में स्वास्थ्य केन्द्र प्रभारियों ने कौन-कौन से सामान, दवा उपकरण आदि अपने स्तर (लोकल पर्चेस) से खरीदा है? कितनी राशि का क्या-क्या क्रय किया है? अस्पताल स्थानवार बतायें? (ग) प्रश्नांश (क) उल्लेखित अवधि में कौन-कौन सी दवा के नमूने जाँच हेतु कहाँ की प्रयोगशाला में भेजे गये? परिणाम कब प्राप्त हुए? क्या परिणाम रहें? अमानक दवा प्रदाय के मामलों में निर्माताओं/आपूर्तिकर्ताओं पर क्या कार्यवाही हुई और क्या कार्यवाही का प्रावधान है? प्रावधानिक कार्यवाही क्यों नहीं की गई? (घ) प्रश्नांश (क) संदर्भित अस्पतालों को प्रदाय एवं उनके द्वारा क्रय दवा, उपकरण एवं सामग्री किस नियम से क्रय की गई क्या इसकी निविदा निकाली गई थी? यदि हाँ, तो निविदा की प्रति बतायें? क्या खरीदी में भंडार क्रय नियम का पालन हुआ है? यदि हाँ, तो अपनाई गई प्रक्रिया बतायें?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में प्रश्न दिनांक तक सागर जिले के सामुदायिक प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों को प्रदाय चिकित्सा उपकरणों की जानकारी अस्पताल स्थानवार सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र–‘’अ’’ अनुसार है। (ख) संस्था प्रभारियों द्वारा सामान, दवा, उपकरण आदि अपने स्तर से लोकल पर्चेस नहीं किये जाते है। (ग) 2015-16 एवं 2016-17 में दवाओं के भेजे गये नमूना जाँच हेतु प्रयोगशाला एवं परिणाम की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र –‘’ब’’ अनुसार है। सागर जिले में उक्त अवधि में कोई दवा अमानक नहीं पाई गई है। अतः कार्यवाही का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (घ) संबंधित अस्पतालों को प्रदाय औषधि/सामग्री/उपकरण राज्य स्तर की निविदा की दरों पर भण्डार क्रय नियम का पालन करते हुए क्रय की गई है। स्थानीय स्तर पर क्रय हेतु ई-निविदा जारी की जाती है। ऑन-लाईन जारी निविदा की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र–‘’स’’ अनुसार है।
आर.टी.ई. अंतर्गत प्राप्त राशि
[स्कूल शिक्षा]
153. ( क्र. 3166 ) श्री हर्ष यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में राइट टू एज्यूकेशन (आर.टी.ई.) एक्ट कब से लागू हुआ? अधिनियम की प्रति दें। (ख) लागू होने की दिनांक से वर्ष 2015-16 तक आर.टी.ई. एक्ट के क्रियान्वयन हेतु भारत सरकार से कब-कब, कितनी-कितनी राशि प्राप्त हुई? (ग) प्रश्नाधीन अवधि में आर.टी.ई. के क्रियान्वयन हेतु व्यत राज्यांश एवं केन्द्रांश की योजनावार जानकारी उपलब्ध करावें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 दिनांक 1.4.2010 से प्रभावशील है। अधिनियम के क्रियान्वयन के लिए राज्य द्वारा निःशुल्क और अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार नियम 2011 दिनांक 26.3.2011 को अधिसूचित किये गये है। अधिनियम की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 पर है। (ख) एवं (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 पर है।
इंस्पायर अवार्ड जिला स्तरीय प्रदर्शनी का उज्जैन में आयोजन
[स्कूल शिक्षा]
154. ( क्र. 3173 ) श्री बहादुर सिंह चौहान : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दिनांक 01/01/2014 से 01/01/2016 तक इंस्पायर अवार्ड जिला स्तरीय प्रदर्शनी उज्जैन में कब-कब आयोजित की गई? (ख) इन पर कब-कब कितनी राशि व्यय की गई की? जानकारी प्रत्येक प्रदर्शनी के संबंध में देवें। इनमें खरीदी किन नियमों के तहत किन फर्मों से की गई। सम्पूर्ण व्यय की जानकारी फार्मवार, व्यक्तिवार देवें। (ग) मनमानीपूर्वक व्यय व भुगतान करने वाले अधिकारियों पर शासन कब तक कार्यवाही करेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) दिनांक 19 अगस्त,2014 से 21 अगस्त, 2014 एवं दिनांक 09 सितम्बर,2015 से 11 सितम्बर 2015 में आयोजित की गई है। (ख) वर्ष 2014 में राशि रूपये 5,42,965.00 एवं वर्ष 2015 में राशि रूपये 5,40,365.00 व्यय की गई। शेषांश की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) व्यय में कोई अनियमितता प्रकाश में नहीं आई है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मध्यप्रदेश भण्डार क्रय नियम अनुसार क्रय
[स्कूल शिक्षा]
155. ( क्र. 3174 ) श्री बहादुर सिंह चौहान : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अता.प्र. क्रमांक 788 दिनांक 18/07/2016 के उत्तर अनुसार मध्यप्रदेश भण्डार क्रय नियम अनुसार अधिकांश खरीदी करना दर्शाया है? इस नियम की प्रमाणित प्रति देवें। (ख) क्या कारण है कि अधिकारियों ने कहीं भी टेण्डर प्रक्रिया नहीं अपनाई? जिन स्थानों पर कोटेशन पर ही भुगतान दर्शाता है, उसका भी कारण बतावें। आर.एम.एस.ए. क्रय नियमों की जानकारी भी देवें। (ग) नियमों की मनमानी व्याख्या कर छोटी से बड़ी राशि तक क्रय करने में टेण्डर न निकालने वाले अधिकारियों पर शासन कब तक कार्यवाही करेगा? सप्लाई फर्मों में से कितनी फर्मों का कितना टी.डी.एस. काटकर भुगतान किया गया की जानकारी प्रश्नांश (क) के संदर्भ में देवें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। नियम की प्रमाणित प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) जी नहीं। भंडार क्रय नियम अनुसार सामग्री क्रय की गई है। टेण्डर की कार्यवाही टेन्ट, भोजन, ध्वनि व्यवस्था, प्रश्न पत्र मुद्रण के लिये की गई है। आर.एम.एस.ए. क्रय नियमों की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ग) उत्तरांश (ख) के प्रकाश में नियमानुसार सीमित निविदा/खुली निविदा की कार्यवाही की गई है। अत: शेषांश का प्रश्न उत्पन्न नहीं होता है। क्रय की गई सामग्री पर टी.डी.एस. कटौत्रा नहीं किया गया है। कृत कार्यवाही की पृथक से जाँच कराई जावेगी।
शालाओं का उन्नयन
[आदिम जाति कल्याण]
156. ( क्र. 3177 ) श्री सुरेन्द्र सिंह बघेल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. शासन द्वारा शैक्षणिक सुविधा बढ़ाने के लिए इस वर्ष 1000 से अधिक हाई स्कूल प्रांरभ किये गये है? यदि हाँ, तो माध्यमिक विद्यालय को उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में अपग्रेड करने की प्रक्रिया कितने स्थानों पर चल रही है एवं कुक्षी विकासखण्ड की शासकीय माध्यमिक विद्यालय उमरी को हाई स्कूल में कब तक अपग्रेड किया जाएगा? (ख) शासकीय माध्यमिक विद्यालय उमरी को हाई स्कूल में अपग्रेड करने पर माध्यमिक विद्यालय आसपुर, दोई उंडली के छात्रों को बाग, कुक्षी हेतु जाने से राहत होगी तो क्या इसकी स्वीकृति तुरंत कर दी जावेगी? (ग) उमरी को अपग्रेड करने के साथ ही आवासीय छात्रावास की सुविधा कब तक प्रदान कर दी जावेगी?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। प्रश्नांकित हाई स्कूल राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान, लोक शिक्षण विभाग द्वारा स्वीकृत किये गये हैं। भारत सरकार से स्वीकृति आने पर स्वीकृति अनुसार निर्भर करेगा। राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान के मापदण्ड में प्रश्नांकित माध्यमिक विद्यालय उमरी उन्नयन हेतु पात्र नहीं है। (ख) राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान अंतर्गत माध्यमिक शाला से हाई स्कूल में प्रश्नांकित शाला उन्नयन के मापदण्ड अंतर्गत नहीं है। (ग) उपरोक्तानुसार।
शासकीय चिकित्सकों द्वारा अन्यत्र प्रेक्टिस करना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
157. ( क्र. 3181 ) श्री बाला बच्चन : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विभाग के आदेश क्रमांक 1982/2835/2013/सत्रक/मेडि-1 दिनांक 07.08.2013 के अनुसार शासकीय चिकित्सक स्वयं अथवा परिजन के नाम से क्लीनिक/निजी हॉस्पिटल संचालन नहीं कर सकेंगे एवं इनमें जाकर प्राइवेट प्रेक्टिस भी नहीं कर सकेगें? इस आदेश की जानकारी भी देवें? (ख) विभाग में इन निर्देशों के पालन कराने के लिए कब-कब क्या-क्या कार्यवाही की समस्त पत्र व्यवहार एवं कार्यवाही की छायाप्रति देवें? (ग) क्या राजधानी भोपाल में ही (क) अनुसार आदेश उल्लंघन करते हुए शासकीय सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र कोलार भोपाल में पदस्थ प्रभारी चिकित्सक द्वारा हजेला हॉस्पिटल भोपाल में शासन के निर्धारित समस्त ओ.पी.डी. समय साय 5 से 6 पर सेवाएं दी जा रही है? इसके लिए इन पर कार्यवाही कब तक की जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-‘‘अ’’ अनुसार है। (ख) विभाग द्वारा निर्देशों की प्रतियाँ पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-‘‘ब’’ अनुसार है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
भाग-3
अतारांकित
प्रश्नोत्तर
स्कूलों
में शिक्षकों
की कमी
[स्कूल शिक्षा]
1. ( क्र. 113 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या पनागर विधान सभा क्षेत्रांतर्गत शासकीय स्कूलों में स्वीकृत अमले के अनुसार शिक्षक पदस्थ नहीं हैं? (ख) क्या वर्तमान में अतिथि शिक्षकों के द्वारा अध्यापन कार्य कराया जा रहा है? (ग) यदि हाँ, तो क्या शालाओं का परिणाम संतोषजनक प्राप्त हो रहा हैं? (घ) यदि नहीं, तो, क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) कक्षा 10 वीं का परीक्षाफल दो विद्यालय (शासकीय उ.मा.वि. बालक पड़वार एवं शासकीय उ.मा.वि. बिलपुर) का छोड़कर शेष समस्त विद्यालयों का परीक्षाफल सन्तोषजनक रहा है। साथ ही 12वीं का परीक्षाफल भी संतोषजनक रहा है। (घ) परीक्षाफल अध्यापन व्यवस्था छात्र-छात्राओं द्वारा की गई पढ़ाई इत्यादि पर निर्भर करता है। परीक्षाफल सन्तोषजनक न होने की स्थिति में कमिश्नर जबलपुर संभाग जबलपुर द्वारा प्राचार्य शासकीय उ.मा.वि. बिलपुरा को ‘‘परिनिन्दा’’ का दण्ड दिया गया है। शासकीय उ.मा.वि. बालक पड़वार में प्राचार्य का पद तत्समय रिक्त होने के कारण प्रभारी प्राचार्य द्वारा प्रस्तुत किया गया प्रत्योत्तर को कलेक्टर जबलपुर द्वारा स्वीकार किया गया है।
अ.जा/ज.जा./गरीबी रेखा कार्ड धारक छात्रों के नि:शुल्क शिक्षा हेतु एडमीशन
[स्कूल शिक्षा]
2. ( क्र. 114 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वर्ष 2016-17 में शिक्षा विभाग द्वारा अ.जा/ज.जा./गरीबी रेखा कार्ड धारक छात्रों के एडमीशन हेतु ऑनलाईन फार्म भराये गये हैं? (ख) क्या जिस वार्ड में छात्र रहता है उसी वार्ड के स्कू्ल में एडमीशन के लिये पात्र है? (ग) यदि हाँ, तो क्या छात्र को अपनी पसंद का स्कू्ल चुनने का अधिकार नहीं है? (घ) क्या प्रश्नांश (ख) के अनुसार एक वार्ड के समस्त स्कूलों की पूरी सीटें भर जाती हैं तो शेष छात्रों को अन्य वार्ड के स्कलों में एडमीशन नहीं दिलाया जायेगा? क्या ऐसी स्थिति में अनेक छात्रों को एडमीशन से वंचित नहीं होना पड़ेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। नि:शुल्क और अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 की धारा 12 (1) (ग) के तहत कमजोर वर्ग एवं वंचित समूह के बच्चों के नि:शुल्क प्रवेश की प्रक्रिया को शैक्षणिक सत्र 2016-17 से ऑनलाईन किया गया है। (ख) जी हाँ। जिस ग्राम/ वार्ड में गैर अनुदान प्राप्त प्राइवेट स्कूल स्थित है, उस ग्राम/वार्ड से आवेदन करने वाले बच्चों को प्रवेश में प्राथमिकता का प्रावधान है। (ग) संबंधित प्राइवेट स्कूल के लिए निर्धारित सीट संख्या के बराबर या कम आवेदन प्राप्त होने पर आवेदक छात्र को प्रवेश मिल सकता है। लेकिन यदि आवेदनों की संख्या निर्धारित सीट संख्या से अधिक है तो प्रवेश ऑनलाईन लाटरी के आधार पर चयनित छात्र को दिया जाता है। (घ) ऑनलाईन प्रवेश की प्रक्रिया में आवेदन करने वाले बच्चे को एक से अधिक स्कूल के चयन का विकल्प रहता है। अत: यदि किसी आवेदक को प्रथम विकल्प के स्कूल में सीट आवंटित नहीं होती है तो दूसरे विकल्पों के आधार पर ऑनलाइन लाटरी के माध्यम से बच्चे को अन्य आवेदित स्कूल में सीट आवंटित हो सकती है। दूसरे विकल्पों के स्कूलों में प्रवेश उपलब्ध सीटों के आधार पर होता है। अत: शेषांश उपस्थित नहीं होता।
हायर सेकण्डरी/हाईस्कूल भवनों की स्वीकृति
[स्कूल शिक्षा]
3. ( क्र. 159 ) श्री हितेन्द्र सिंह ध्यान सिंह सोलंकी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बड़वाह विधान सभा क्षेत्र के माध्यमिक, प्राथमिक हायर सेकेण्डरी एवं हाईस्कूल भवनों की सूची दी जावे तथा ऐसे कितने भवन हैं जो जीर्ण-शीर्ण अवस्था में हैं तथा विभाग द्वारा खतरनाक घोषित करने के बाद भी उनमें कक्षाएं संचालित की जा रही हैं तथा ऐसे स्कूल भवन हैं जो अन्य शासकीय भवनों में संचालित हो रहे हैं तथा ऐसे कितनी स्कूल संचालित की जा रही है जो भवनविहीन है? (ख) बड़वाह विधान सभा क्षेत्र में भवन विहीन स्कूल संचालित किये जाने से उत्पन्न स्थिति पर जन प्रतिनिधियों द्वारा समय-समय पर भवन स्वीकृति के बारे में प्रस्तुत प्रस्तावों पर विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई है? क्या ग्राम हिरापुर में हायर सेकेण्डरी भवन न होने से प्रश्नकर्ता द्वारा राज्य शासन एवं जिला स्तर पर प्रस्ताव प्रस्तुत किये गये थे? प्राप्त प्रस्तावों पर विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई? (ग) प्रश्नांश (ख) के अनुसार जनप्रतिनिधियों के प्राप्त प्रस्तावों पर विभाग द्वारा की गई कार्यवाही में जहां भवन नहीं हैं, वहां भवनों की स्वीकृति कब तक की जावेगी? क्या भवनों की बाउण्ड्रीवाल की स्वीकृति के कोई प्रावधान है? यदि हाँ, तो नियम की प्रति दी जावे। विधान सभा क्षेत्र बड़वाह में ऐसे कितने प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालय, हाईस्कूल, हायरसेकेण्डरी भवन हैं, जिनकी बाउण्ड्रीवाल है एवं जिनकी नहीं है, उसकी जानकारी दी जावे? क्या जिनकी बाउण्ड्रीवाल नहीं है, उन्हें बाउण्ड्रीवाल कब तक स्वीकृति की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) हाई व हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार। कोई भी शासकीय हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल के भवन जीर्ण-शीर्ण/जर्जर अवस्था में नहीं है। भवनविहीन शासकीय हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल के भवनों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार है। बड़वाह विधानसभा क्षेत्र के शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। बड़वाह विधानसभा क्षेत्र में 10 शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शाला भवन है, जिन्हें लोक निर्माण विभाग द्वारा जीर्ण-शीर्ण घोषित किया गया है। उनमें शालायें संचालित नहीं हो रही है। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। अन्य शासकीय भवनों में किसी भी शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शाला का संचालन नहीं किया जा रहा है। 10 शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाएं भवन विहीन है, जो एक ही परिसर में उपलब्ध अतिरिक्त कक्षों में संचालित हो रही है। (ख) हाई/हायर सेकेण्डरी शाला भवनों के निर्माण के बारे में प्राप्त प्रस्तावों की स्वीकृति बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। प्राथमिक/माध्यमिक शाला जो भवन विहीन है उनके वारे में प्रतिनिधियों द्वारा प्रस्तुत प्रस्तावों को जिले की वार्षिक कार्य योजना में भारत शासन को स्वीकृति हेतु प्रस्तुत किये जाते है। ग्राम हीरापुर के हायर सेकेण्डरी भवन के बारे में प्रस्ताव प्राप्त नहीं हुआ है। (ग) हाई/हायर सेकेण्डरी शाला भवनों के निर्माण एवं बाउण्ड्रीवॉल निर्माण की स्वीकृति बजट की उपलब्धता पर निर्भर करती है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। प्राथमिक व माध्यमिक शालाओं हेतु निःशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा का अधिकार के अधिनियम की धारा 19 एवं 25 के अनुसार विद्यालय के लिये मानक और मानक के क्रम संख्या-2-भवन के भाग- (vii) सीमा दीवाल या वाड़ द्वारा विद्यालय भवन की सुरक्षा करने के लिये व्यवस्थाएं का प्रावधान है। नियम की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है। प्राथमिक/ माध्यमिक शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल की स्थिति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-द अनुसार है। ऐसे प्राथमिक/माध्यमिक शालाएं जिनकी बाउण्ड्रीवॉल नहीं है उनके प्रस्ताव जिले की वार्षिक कार्ययोजना में 2017-18 में भारत शासन को स्वीकृति हेतु प्रेषित किये गए है। समय-सीमा बताना संभव नहीं है।
भवनविहीन स्कूलों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
4. ( क्र. 189 ) श्री कैलाश चावला : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नीमच जिले के मनासा विधानसभा क्षेत्र में कितने माध्यमिक विद्यालय ऐसे हैं, जो तीन वर्षों से अधिक से संचालित किए जा रहे हैं व भवनविहीन हैं? स्कूलवार जानकारी प्रदान की जावे। (ख) विभाग द्वारा क्या योजना बनाई गई, कब तक इन स्कूलों के भवन स्वीकृत कर दिए जावेंगे।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) नीमच जिले के विधानसभा क्षेत्र मनासा में भवनविहीन शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाएं जो विगत तीन वर्षों से अधिक से संचालित है की स्कूलवार जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) युक्तियुक्तकरण के तहत खोली गई शालाओं के भवन निर्माण की स्वीकृति वार्षिक कार्ययोजना 2017-18 में प्रस्तावित की गई है। भारत शासन से स्वीकृति प्राप्त होने पर भवन निर्माण करा जा सकता। समय-समय बताना संभव नहीं है।
छात्र-छात्राओं को छात्रवृत्ति वितरण
[स्कूल शिक्षा]
5. ( क्र. 208 ) श्री चम्पालाल देवड़ा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) देवास जिले के बागली विकासखण्ड के हायर सेकण्डरी स्कूल उदयनगर, हाई स्कूल देवनलिया व कन्नौद विकासखण्ड के हायर सेकण्डरी स्कूल बाई जगवाड़ा में कक्षा 9वीं से कक्षा 12वीं तक कितने छात्र-छात्राऐं अ.जा./अ.ज.जा./पि.वर्ग की अध्ययनरत है? अध्ययनरत कितने छात्र-छात्राओं की सत्र 2015-16, 2016-17 में शासन की ओर से दी जाने वाली कौन-कौन सी छात्रवृत्ति, प्रोत्साहन राशि दी जानी थी? कितने विद्यार्थियों को प्रश्नांकित दिनांक तक छात्रवृत्ति वितरण हो गई है? (ख) प्रश्नांकित (क) में कितने अध्ययनरत छात्र-छात्राएं हैं, जिनको विगत 2 वर्षों से शासन के द्वारा दी गई छात्रवृत्ति प्रश्नांकित दिनांक तक प्राप्त नहीं हुई है? अगर प्राप्त नहीं हुई है तो कारण बताइये? (ग) शेष छूटे हुये अध्ययनरत छात्र-छात्राओं को कब तक छात्रवृत्ति, प्रोत्साहन राशि वितरण की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। विद्याथिर्यों के बैंक एकाउन्ट त्रुटिपूर्ण होने के कारण छात्रवृत्ति वितरण शेष है। (ग) विद्याथिर्यों द्वारा सही बैंक खाते उपलब्ध कराने पर छात्रवृत्ति का भुगतान किया जा सकेगा।
बंद की गई N.B.S.U. इकाई प्रारंभ करने विषयक
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
6. ( क्र. 219 ) श्री चम्पालाल देवड़ा : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) देवास जिले के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बागली में N.B.S.U. इकाई कब प्रारंभ की गई थी व कब बंद की गई है, व बंद करने के क्या कारण हैं? (ख) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बागली में N.B.S.U. इकाई कितने दिनों तक चलाई गई, चलाई गई अवधि में कुल कितने नवजात शिशुओं का उपचार किया गया? (ग) क्या प्रश्नांकित इकाई बंद होने से क्षेत्र के अ.ज.जा वर्ग के सैकड़ों नवजात शिशुओं को योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है, जिसके कारण B.P.L. कार्डधारी व अ.ज.जा. वर्ग के परिवार कर्ज लेकर प्रायवेट चिकित्सालयों में जाने को मजबूर है? अगर हां, तो इकाई बंद करने या जिन कारणों से इकाई बंद हुई है, उन जिम्मेदारों पर कार्यवाही कर N.B.S.U. इकाई कब तक प्रारंभ की जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) देवास जिले के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, बागली में एन.बी.एस.यू. इकाई दिनांक 09 जुलाई, 2013 को प्रारंभ की गई। वर्ष 2015-16 में कार्य आधारित समीक्षा के दौरान ज्ञात हुआ कि सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, बागली में एन.बी.एस.यू. द्वारा अपेक्षित सेवायें प्रदान नहीं की जा रही हैं, इस कारण इस यूनिट को दिनांक 19 सितम्बर, 2016 को बंद कर दिनांक 02 फरवरी, 2017 को पुनः प्रसवोत्तर वार्ड के साथ स्थापित कर निरंतर रखा गया। (ख) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, बागली में एन.बी.एस.यू. इकाई दिनांक 09.07.2013 से 19.09.2016 तक चलाई गई। इस अवधि में कुल 703 नवजात शिशुओं को उपचारित किया गया। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
छात्र-छात्राओं को नि:शुल्क सायकल वितरण
[स्कूल शिक्षा]
7. ( क्र. 220 ) श्री चम्पालाल देवड़ा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सर्व शिक्षा अभियान अंतर्गत कक्षा 8 वीं एवं कक्षा 9 वीं के नव प्रवेशित छात्र-छात्राओं को नि:शुल्क सायकल प्रदान करने के क्या प्रावधान हैं, कौन-कौन से छात्र-छात्राएं योजना के लिये पात्र होती हैं, आदेश की छायाप्रति उपलब्ध करायें। (ख) क्या देवास जिले के बागली वि.ख. एवं कन्नौद वि.ख. अ.ज.जा. बाहुल्य है एवं यहां पर अधिकांश लोग मूल ग्राम से 2 से 4 K.M. तक की दूरी पर मजरों/टोलों बसाहटों में निवास करते हैं? क्षेत्र में क्या शासन की मंशा अनुरूप वहां के छात्र-छात्राओं को सत्र 2016-17 में सायकल का वितरण किया गया है? (ग) क्या यह सच है कि मजरों, टोलों, बसाहटों में निवासरत् परिवारों के छात्र-छात्राएं जो 1 से 5 K.M. तक पैदल चलकर आते हैं और उन्हें सायकल नहीं मिल पा रही है? अगर हाँ तो क्यों नहीं मिल पाई है? क्या शासन स्तर के शेष छूटे हुये छात्र-छात्राओं को सायकल दी जावेगी? अगर हां, तो कब तक दी जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रावधान अनुसार बागली विकासखंड में 1005 तथा कन्नौद विकासखंड में 846 पात्र छात्र/ छात्राओं को सत्र 2016-17 में साइकिल वितरण किया गया हैं। (ग) प्रावधान अनुसार दूरी के आधार पर साइकिल की पात्रता नहीं हैं। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
विभाग की वार्षिक कार्ययोजना
[आदिम जाति कल्याण]
8. ( क्र. 251 ) श्री निशंक कुमार जैन : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग में वार्षिक कार्ययोजना तैयार किये जाने का प्रावधान है या नहीं? इस कार्ययोजना का क्या उद्देश्य है? (ख) वर्ष 2016-17 की कार्ययोजना में प्रश्नकर्ता के विधान सभा क्षेत्र बासौंदा अंतर्गत किस-किस कार्य को सम्मिलित किया गया है? कार्य का नाम, लागत अन्य जानकारी उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (ख) उल्लेखित कार्ययोजना में सम्मिलित कितने कार्य स्वीकृत हो चुके हैं, कितने शेष हैं, शेष कार्यों की स्वीकृति कब तक जारी की जावेगी?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। अनुसूचित जनजाति बहुल ग्रामों/ बस्तियों तथा नगरीय अनुसूचित जनजाति बहुल बस्तियों के विकास तथा इन ग्रामों/ बस्तियों की मूलभूत सुविधाओं संबंधी आवश्यकताओं की पूर्ति करना, कार्ययोजना का उद्देश्य है। (ख) निरंक। (ग) प्रश्नांश ''ख'' के प्रकाश में जानकारी निरंक है।
अनुदान प्राप्त स्कूल
[स्कूल शिक्षा]
9. ( क्र. 255 ) श्री जितेन्द्र गेहलोत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सरकार अनुदान प्राप्त एवं निजी स्कूलों को सरकारी स्कूल के रूप में परिवर्तित करने संबंधी कोई निर्णय करने जा रही है? यदि हाँ, तो तत्संबंधी ब्यौरा क्या है? (ख) यदि प्रश्नांश (क) संबंधी कोई निर्णय सरकार ने नहीं लिया है तो उक्त संबंध में वर्ष २००२ से मामला लंबित था? सुप्रीम कोर्ट से क्या निर्णय हुआ? (ग) क्या अनुदान प्राप्त एवं निजी स्कूल जिला पंचायतों व नगरीय निकायों के नियंत्रण में दिये जाने की योजना है? यदि हाँ, तो ब्यौंरा दें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) वर्ष 2002 में जिन अशासकीय एवं अनुदान प्राप्त विद्यालयों को निकायाधीन किए जाने का आदेश जारी किया था एवं वर्ष 2004 निरस्त किया गया था, उन 56 विद्यालयों को निकायाधीन किए जाने का निर्णय लिया गया है। (ख) एवं (ग) उत्तरांश 'क' प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
आशा कार्यकर्ताओं को प्रोत्साहन राशि का प्रावधान
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
10. ( क्र. 326 ) श्री जतन उईके : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छिंदवाड़ा जिले के पांढुर्णा विधानसभा क्षेत्र में कितने आशा कार्यकर्ता हैं? इन्हें प्रतिमाह प्रोत्साहन राशि किस आधार पर प्रदाय की जा रही है? (ख) क्या पांढुर्णा मोहखेड़ विकासखण्ड में कार्यरत आशा कार्यकर्ताओं को प्रतिमाह प्रोत्साहन राशि नहीं मिल रही है? यदि हाँ, तो फिर उनके परिवार की जीवनचर्या किस प्रकार होती होगी? (ग) क्या इन कार्यकर्ताओं को प्रतिमाह प्रोत्साहन राशि प्रदान नहीं की जा सकती? क्या कारण है कि इन्हें राशि समय से नहीं दी जाती है? जिम्मेदार कौन है? (घ) क्या गांव की बेटी का प्रसव होने पर एवं बहु के प्रसव पर अलग-अलग प्रोत्साहन राशि देने का प्रावधान है? यदि हाँ, तो ऐसा क्यों? नियम की छायाप्रति उपलब्ध करायें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) छिंदवाड़ा जिले के पांढुर्णा विधानसभा क्षेत्र 261 आशा कार्यकर्ता कार्यरत है। इन्हे प्रतिमाह कार्य आधारित प्रोत्साहन राशि प्रदान की जाती है। (ख) जी नहीं, मोहखेड़ विकास खण्ड की आशा कार्यकर्ताओं को प्रतिमाह प्रोत्साहन राशि दी जाती है। केवल जिन आशाओं द्वारा समय से भुगतान पत्रक जमा न किया गया हो अथवा जो आशाऐं निष्क्रिय होती है उनको प्रोत्साहन राशि नहीं दी जाती है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। प्रश्न (ख) के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
रोगी कल्याण समिति के व्यय की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
11. ( क्र. 327 ) श्री जतन उईके : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छिंदवाड़ा जिले के पांढुर्णा विधानसभा क्षेत्र के चिकित्सालयों में विगत 5 वर्षों में वर्षवार रोगी कल्याण समिति में कितनी-कितनी राशि प्राप्त हुई? रोगी कल्याण समिति से प्राप्त राशि के व्यय के शासन के क्या निर्देश हैं? विधानसभावार चिकित्सालयवार जानकारी देवें। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित चिकित्सालयों में पिछले 5 वर्षों में किस-किस मद में कौन-कौन से निर्माण कार्य कितनी राशि के स्वीकृत हुए हैं? क्या निर्माण कार्यों में स्थानीय जनप्रतिनिधियों से सलाह लिये जाने का प्रावधान है? स्वीकृत कार्यों में भंडार क्रय नियमों का पालन किया गया है या नहीं? विधान सभा क्षेत्रवार जानकारी देवें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। रोगी कल्याण समिति की नियमावली, 2010 के अनुरूप। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) रोगी कल्याण समिति के माध्यम से विगत पाँच वर्षों में कोई निर्माण कार्य स्वीकृत नहीं किये गये है। जी हाँ। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय विद्यालयों में खेल मैदान
[आदिम जाति कल्याण]
12. ( क्र. 394 ) प्रो. संजीव छोटेलाल उइके : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) आदिवासी जिला मण्डला अंतर्गत मण्डला विधानसभा क्षेत्र के कितने शासकीय विद्यालयों में खेल मैदान उपलब्ध हैं? प्राथमिक स्तर, माध्यमिक स्तर हाई स्कूल स्तर एवं हायर सेकेण्डरी स्तर पर जानकारी उपलब्ध करायें? उनमें से कितने खेल मैदान अविकसित हैं और कितने खेल मैदान खेल गतिविधियों के लिए उपयुक्त हैं? अविकसित खेल मैदानों के विकास न होने के कारण सहित जानकारी देवें? (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में क्या खेल मैदानों के उन्नयन और विकास के लिए शासन की कोई योजना है? यदि हाँ, तो विद्यालयवार कितने बजट का प्रावधान किया गया है? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में वर्ष 2013 से प्रश्न दिनांक तक कितना बजट प्रदान किया गया? विद्यालयवार, मदवार, राशिवार तथा वर्षवार व्यय की जानकारी दें? (घ) क्या उक्त मैदानों पर शासकीय-अशासकीय अतिक्रमण हो रहा है? यदि हाँ, तो सीमांकन कराकर अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही कब तक की जावेगी?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। विद्यालयों में खेल मैदानों के विकास हेतु पृथक से बजट प्रावधान नहीं है। (ख) पृथक से कोई योजना नहीं है। (ग) एवं (घ) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मण्डला जिले में सी.बी.एस.ई. पैटर्न से संचालित स्कूल
[स्कूल शिक्षा]
13. ( क्र. 395 ) प्रो. संजीव छोटेलाल उइके : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मण्डला जिले में सी.बी.एस.ई. के कितने स्कूल तथा सी.बी.एस.ई. पैटर्न के कितने स्कूल प्रायमरी से हायर सेकण्डरी तक निजी पूंजी से संचालित है? उनका नाम विवरण मान्यता तथा संचालन तिथि बतावें? (ख) क्या शासन के आदेशों/निर्देशों के अनुसार उक्त स्कूलों में बी.पी.एल. धारी परिवारों के बच्चों को भर्ती करना आवश्यक है? यदि हाँ, तो कितने प्रतिशत? (ग) क्या उक्त आदेशों के परिपालन में उक्त निजी स्कूलों में संख्या के आधार पर बच्चों का एडमीशन किया गया? यदि हाँ, तो प्रत्येक स्कूल में भर्ती किये गये बच्चों की संख्या एवं विवरण प्रायमरी, माध्यमिक, हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी का देवें? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) क्या बी.पी.एल. कार्डधारी परिवार के बच्चों को शुल्क आदि में रियायत मिलती है, तथा क्या छात्रवृत्ति का भी प्रावधान है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी परिशिष्ट-अ अनुसार। (ख) जी हाँ। शिक्षा का अधिकार अधिनियम, 2009 की धारा-12 (1) (सी) के अन्तर्गत गैर अनुदान प्राप्त अशासकीय विद्यालयों में वंचित समूह एवं कमजोर वर्ग के बच्चों को कक्षा-1 या प्री-स्कूल की प्रथम प्रवेशित कक्षा में न्यूनतम 25 प्रतिशत सीटों पर निःशुल्क प्रवेश का प्रावधान है। राज्य शासन द्वारा कमजोर वर्ग में गरीबी रेखा के नीचे (बी.पी.एल.) जीवन यापन करने वाले परिवार को शामिल किया गया है। हाई एवं हायर सेकेण्डरी संस्थाओं में बी.पी.एल. कार्डधारी परिवार के बच्चों को प्रवेश हेतु कोई प्रतिशत निर्धारित करने संबंधी के आदेश/निर्देश नहीं है। (ग) जी हाँ। प्राप्त आवेदनों में से पात्र बच्चों को प्रवेश दिया गया है। प्रवेशित बच्चों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट में समाहित है। मॉण्टफोर्ट उ.मा.वि. मण्डला द्वारा सत्र 2012-13 से अल्पसंख्यक शैक्षणिक संस्था होने का प्रमाण पत्र प्राप्त कर लेने के कारण अधिनियम के अन्तर्गत निःशुल्क प्रवेश नहीं दिया गया है। शेषांश उत्तरांश 'ख' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) जी हाँ। शिक्षा का अधिकार नियम, 2009 की धारा 12 (1) (सी) के अन्तर्गत गैर-अनुदान प्राप्त अशासकीय विद्यालयों में वंचित समूह एवं कमजोर वर्ग के प्रवेशित बच्चों की फीस प्रतिपूर्ति राज्य शासन द्वारा अधिनियम की धारा-12 (2) में किये गये प्रावधान अनुसार की जाती है। शेषांश जी नहीं। समेकित छात्रवृत्ति योजनान्तर्गत केवल बी.पी.एल. कार्डधारी होने के आधार पर कोई छात्रवृत्ति योजना संचालित नहीं है। योजनान्तर्गत विभिन्न छात्रवृत्तियों हेतु निर्धारित आय सीमा, शर्तों व पात्रता अनुसार छात्रवृत्ति का प्रावधान है।
स्कूलों में कार्यरत एकाउंटेंट, सहायक ग्रेड-2 एवं सहायक ग्रेड-3.
[स्कूल शिक्षा]
14. ( क्र. 482 ) श्री सतीश मालवीय : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) उज्जैन जिले में हायर सेकण्डरी एवं हाई स्कूलों में कितने एकाउंटेंट, सहायक ग्रेड-2 एवं सहायक ग्रेड-3 तथा भृत्य तीन वर्ष से अधिक अवधि से एक ही संस्था में कार्यरत हैं? सूची उपलब्ध करावें। (ख) क्या प्रश्नांश (क) में दर्शित पदों पर तीन वर्ष में पद्स्थापना परिवर्तन का नियम लागू नहीं होता है? यदि लागू होता है तो उन्हें स्थानांतरित क्यों नहीं किया गया? स्थानांतरण सम्बंधित नियमों का पालन न करने वाले अधिकारियों/कर्मचारियों पर क्या कार्यवाही की जावेगी तथा उक्त स्थानांतरण कब तक किया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) दर्शित पदों पर तीन वर्ष में पदस्थापना परिवर्तन का नियम लागू है। जिला अंतर्गत वर्ष 2015 की स्थानांतरण नीति के अनुसार 48 लिपिक एवं 09 भृत्य के स्थानांतरण किये गये थे शेष पर कार्यवाही प्रचलन में है।
स्थानांतरण प्रमाण पत्र एवं अंकसूची के संबंध में
[स्कूल शिक्षा]
15. ( क्र. 483 ) श्री सतीश मालवीय : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रारम्भिक शिक्षा कक्षा 1 से 8 तक में किसी संस्था में अध्ययनरत छात्र अथवा अभिभावक द्वारा शुल्क जमा न करने की स्थिति में शाला त्यागी छात्र जो अन्य किसी विद्यालय में प्रवेश लेता है तो उसे स्थानांतरण प्रमाण पत्र एवं पूर्व कक्षा की अंकसूची की प्रतिलिपि नवीन संस्था में जमा कराना अनिवार्य है अथवा नहीं? (ख) यदि नहीं, तो पूर्व संस्था के देयक के भुगतान हेतु क्या नियम है एवं छात्र की शैक्षिक उपलब्धि स्तर का मापन किस आधार पर करके उसे किस कक्षा में प्रवेश दिया जावेगा इसका निर्धारण किया जाता है तथा नवीन संस्था में प्रवेश सत्र में किस माह तक दिया जा सकता है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) छात्र का एक स्कूल से दूसरे स्कूल में स्थानांतरण होने पर प्रवेश के समय यदि स्थानांतरण प्रमाण पत्र उपलब्ध नहीं है तो उसे प्रवेश से वंचित नहीं किया जा सकेगा। यह प्रमाण पत्र बाद में जमा किया जा सकेगा। शिक्षा का अधिकार अधिनियम की धारा 5 में किये गये प्रावधान की जानकारी संलग्न परिशिष्ट पर है। (ख) उत्तरांश-क के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। नवीन संस्था में स्थानांतरण पर प्रवेश के लिए कोई समय-सीमा निर्धारित नहीं है।
शिवपुरी मेडिकल कॉलेज का निर्माण
[चिकित्सा शिक्षा]
16. ( क्र. 503 ) श्री रामसिंह यादव : क्या राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शिवपुरी में नवीन मेडिकल कॉलेज खोले जाने की स्वीकृति प्रदान की गई है? यदि हाँ, तो स्वीकृति पत्र की छायाप्रति संलग्न कर जानकारी दें कि उक्त नवीन मेडिकल कॉलेज का निर्माण कार्य प्रश्न दिनांक तक प्रारंभ क्यों नहीं हुआ है? निर्माण कार्य कब से शुरू होगा? (ख) शिवपुरी मेडिकल कॉलेज खोले जाने के स्वीकृति आदेश दिनांक से प्रश्न दिनांक तक भारत सरकार ने मध्यप्रदेश शासन को कौन-कौन से पत्र एवं प्रस्ताव कब-कब प्रेषित किए तथा मध्यप्रदेश शासन ने भारत सरकार को कौन-कौन से पत्र एवं प्रस्ताव कब-कब प्रेषित किए? पत्रों/प्रस्ताव की छायाप्रति संलग्न कर जानकारी दे? (ग) प्रश्नांश (ख) में वर्णित भारत सरकार से प्राप्त पत्रों/प्रस्तावों पर राज्य शासन द्वारा कब-कब क्या-क्या कार्यवाही की गई? की गई कार्यवाही की प्रति संलग्न कर जानकारी दें? (घ) क्या शिवपुरी मेडिकल कॉलेज निर्माण कार्य में अनावश्यक विलंब हो रहा है? यदि नहीं, तो शिवपुरी के साथ एवं बाद में स्वीकृत मेडिकल कॉलेजों का निर्माण कार्य प्रारंभ हो गया है परंतु शिवपुरी मेडिकल कॉलेज का निर्माण कार्य प्रारंभ नहीं हुआ है, ऐसा क्यों?
राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा ( एडवोकेट शरद जैन ) : (क) जी हाँ। भारत सरकार से चिन्हित किये जाने के पश्चात् राज्य सरकार की स्वीकृति के लिए प्रक्रिया प्रारंभ की गई। परियोजना का विस्तृत परियोजना प्रतिवेदन तैयार कर भारत सरकार से स्वीकृत कराया गया। निर्माण कार्य संबंधी सभी प्रक्रियाओं को पूर्ण कर लिया गया है। निर्माण कार्य 2017-18 में प्रारंभ किया जायेगा। (ख) शिवपुरी में मेडिकल कॉलेज खोलने हेतु भारत सरकार एवं राज्य शासन के मध्य एम.ओ.यू. सम्पादित होने के पश्चात् शिवपुरी मेडिकल कॉलेज से संबंधित पत्र व्यवहार, भारत सरकार द्वारा नहीं किया गया है। (ग) प्रश्नांश ‘‘ख’’ के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) जी. नहीं। शिवपुरी के पश्चात् किसी भी स्थान पर चिकित्सा महाविद्यालय स्वीकृत नहीं किया गया है। साथ में चिन्हित रतलाम, विदिशा तथा शहडोल में नवीन मेडिकल कॉलेज का निर्माण प्रारंभ हो गया है। उक्त निर्माण जन भागीदारी परियोजना के रूप में किये जाने के कारण प्रक्रिया पहले प्रारंभ हो गई थी।
चिकित्सकों/विशेषज्ञों के रिक्त पदों की पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
17. ( क्र. 504 ) श्री रामसिंह यादव : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कोलारस विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत दिसम्बर 2016 की स्थिति में चिकित्सकों/विशेषज्ञों एवं अन्य स्वास्थ्य कर्मचारियों के कौन-कौन से पद कहाँ-कहाँ पर स्वीकृत हैं? इनमें से कौन-कौन से पद कहाँ-कहाँ पर कब से रिक्त हैं? रिक्त पद कब तक भरे जावेंगे? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में वर्णित स्वीकृत पद काफी वर्ष पूर्व स्वीकृत किए गए थे? तब से वर्तमान तक काफी जनसंख्या वृद्धि हो चुकी है? जनसंख्या वृद्धि के बावजूद नवीन पद भी स्वीकृत नहीं किए गए और जो पुराने स्वीकृत पद हैं, उन्हें भी शासन नहीं भर रहा है? इसका क्या कारण है? (ग) शिवपुरी शहर में 31 जनवरी 2017 की स्थिति में जिला चिकित्सालय सहित चिकित्सकों/विशेषज्ञों एवं अन्य कर्मचारियों के कौन-कौन से पद स्वीकृत हैं? इनमें से कौन-कौन से पद भरे हैं? कौन-कौन से पद रिक्त हैं? रिक्त पद कब तक भरे जावेंगे? मूल पदस्थापना के विरूद्ध कौन-कौन कहाँ-कहाँ पर कब से अटैच है? (घ) क्या जिला चिकित्सालय शिवपुरी के चार मेडिकल विशेषज्ञों ने वी.आर.एस. हेतु आवेदन किया था? यदि हाँ, तो आवेदन कब प्राप्त हुआ? उस पर कब क्या कार्यवाही हुई? शासन द्वारा इनका वी.आर.एस. कब स्वीकृत की गई? यदि निर्धारित अवधि में वी.आर.एस. स्वीकृत नहीं की गई? तो संबंधित विशेषज्ञों को इस संबंध में कब अवगत कराया? यदि अवगत नहीं कराया तो क्यों? वी.आर.एस. से रिक्त पदों की पूर्ति हेतु शासन ने क्या त्वरित कार्यवाही की?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। रिक्त पद पूर्ति की कार्यवाही निरंतर जारी है, निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है। (ख) जी हाँ। जी हाँ। जी नहीं, प्रदेश में विशेषज्ञ/चिकित्सकों के पदों का पुनर्वितरण विभाग द्वारा वर्ष 2011 में किया गया है। प्रदेश में विभिन्न स्वास्थ्य संस्थाओं में निर्धारित मापदण्ड अनुसार उन्नयन संबंधी कार्यवाही निरंतर जारी रहती है। पदपूर्ति न होने का मुख्य कारण विभाग में विशेषज्ञ/चिकित्सकों की अत्यधिक कमी है, समस्त पदों हेतु पदपूर्ति की कार्यवाही निरंतर जारी है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’ब’’ अनुसार है। पदपूर्ति की कार्यवाही निरंतर जारी है, निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है। संलग्नीकरण की जानकारी निरंक है। (घ) जी हाँ। डॉ. पी. डी. गुप्ता, मेडिकल विशेषज्ञ द्वारा दिनांक 03.11.2016 को, डॉ. देवेन्द्र कुमार बंसल, मेडिकल विशेषज्ञ द्वारा दिनांक 06.12.2016 को, डॉ. चंद्रमोहन गुप्ता, मेडिकल विशेषज्ञ द्वारा दिनांक 15.12.2016 को, डॉ. रत्नेश जैन, मेडिकल विशेषज्ञ द्वारा दिनांक 20.12.2016 को स्वैच्छिक सेवा निवृत्ति संबंधी आवेदन मुख्य चिकित्सा एवं सवास्थ्य अधिकारी को प्रस्तुत किए गए जिन्हें दिनांक 13.12.2016, 15.12.2016, 15.12.2016 एवं 22.12.2016 को संचालनालय में प्रेषित किया गया। प्रकरण तैयार कर सक्षम स्तर से अनुमति उपरांत आदेश जारी किए जाने की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है, प्रक्रिया पूर्ण होने पर अवगत कराया जावेगा। विभाग द्वारा प्रकरण में त्वरित कार्यवाही करते हुए जिला ग्वालियर से 02 मेडिकल विशेषज्ञों डॉ. रमाकांत चतुर्वेदी एवं डॉ. के. के. गुप्ता की ड्युटी जिला चिकित्सालय शिवपुरी में लगाई गई तथा जिला चिकित्सालय छतरपुर से 02 मेडिकल विशेषज्ञों का स्थानांतरण जिला चिकित्सालय शिवपुरी किया गया है। वर्तमान में 02 मेडिकल विशेषज्ञ जिला चिकित्सालय शिवपुरी में सेवायें प्रदान कर रहे हैं।
शासन के जारी आदेशों एवं निर्देशों का पालन
[स्कूल शिक्षा]
18. ( क्र. 536 ) श्री सुन्दरलाल तिवारी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राज्य शिक्षा केन्द्र भोपाल द्वारा वर्ष 2012-13 में एम.आई.एस. समन्वयक, डाटा एन्ट्री ऑपरेटर, मोबाइल स्त्रोत सलाहकारों की नियुक्ति संविदा आधारों पर की गई थी? (ख) यदि प्रश्नांश (क) हाँ तो संबंधितों को मासिक वेतन के रूप में कितनी-कितनी राशि किन-किन को मिल रही है? म.प्र. शासन वित्त विभाग वल्लभ भवन भोपाल मंत्रालय भोपाल के आदेश क्र. एफ-8/2009/नियम/ चार भोपाल, दिनांक 20 अगस्त 2009 के आधार पर पुनरीक्षित वेतन संबंधितों को दिया जा रहा है? यदि हाँ, तो कब से, अगर नहीं दिया जा रहा तो क्यों। साथ ही यह भी बतावें कि इसका पालन कब से कराया जायेगा? क्या राज्य शिक्षा केन्द्र भोपाल एवं जिला शिक्षा केन्द्रों के पदस्थ संविदा कर्मचारियों को पुनरीक्षित वेतन का लाभ दिया जा रहा है? (ग) प्रश्नांश (क) के कर्मचारियों के मासिक परिलब्धियों के निर्धारण बाबत राज्य शिक्षा केन्द्र द्वारा आदेश क्र. 9239 दिनांक 28.12.2016 के माध्यम से भी आदेश जारी किया गया था? (घ) प्रश्नांश (क) के कर्मचारियों को प्रश्नांश (ख) एवं (ग) अनुसार पुनरीक्षित वेतनमान शासन के जारी आदेश के बाद भी न किये जाने के लिए कौन-कौन दोषी हैं? इसके लिए दोषियों पर क्या कार्यवाही करेंगे एवं संबंधितों के पुनरीक्षित वेतनमान दिलाने के साथ जारी आदेश दिनांक से एरियर्स का भी भुगतान करावेंगे? करावेंगे तो कब तक, अगर नहीं तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) वर्ष 2012-13 में एम.आई.एस. समन्वयक एवं वर्ष 2013-14 में डाटा एन्ट्री ऑपरेटर के पद हेतु प्रोफेशनल इक्जामिनेंशन बोर्ड से आयोजित परीक्षा के माध्यम से चयनित अभ्यार्थी तथा वर्ष 2014 में मोबाईल स्त्रोत सलाहकार के पदों हेतु एम.पी. ऑनलाईन के माध्यम से आयोजित ऑनलाईन चयन परीक्षा के आधार पर चयनित अभ्यर्थियों को संविदा नियुक्ति दी गई। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। जी नहीं। संविदा पर कार्यरत कर्मचारियों को मासिक परिलब्धियां राज्य स्तरीय कार्यकारिणी समिति के अनुमोदन उपरांत देय होती हैं। सर्व शिक्षा अभियान मिशन अंतर्गत स्वीकृत पद परियोजना के पद हैं। परियोजना पदों पर कार्यरत संविदा कर्मचारी शासकीय सेवक नहीं हैं। राज्य शिक्ष केन्द्र के आदेश क्रमांक राशिके/वित्त/ 2016/9234, दिनांक 28.12.2016 के द्वारा इन समस्त कार्यरत कर्मचारियों को मानदेय भुगतान जारी करने के निर्देश दिये गये है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) जी हाँ। आदेश राज्य शिक्षा केन्द्र के आदेश क्रमांक 2016/9234/ दिनांक 28-12-2016 के द्वारा जारी किया गया (घ) उत्तरांश ''ख'' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
एक ही स्थान पर वर्षों से पदस्थ लिपिकों के स्थानांतरण
[स्कूल शिक्षा]
19. ( क्र. 586 ) श्री तरूण भनोत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) लोक शिक्षण संचालनालय म.प्र. भोपाल द्वारा तीन वर्ष से एक ही स्थान पर पदस्थ लिपिकों के स्थानांतरण किये जाने के निर्देश जारी किये गये थे? जिला शिक्षा अधिकारी जबलपुर द्वारा लिपिकों के स्थानान्तरण किये गये है? स्थानांतरित लिपिकों की सूची देवें? (ख) कार्यालय जिला शिक्षा अधिकारी जबलपुर एवं कार्यालय संयुक्त संचालक लोक शिक्षण जबलपुर संभाग जबलपुर में कुल कितने लिपिक पदस्थ हैं? पद नाम सहित सूची दी जावे। संयुक्त संचालक लोक शिक्षण जबलपुर संभाग जबलपुर, कार्यालय जिला शिक्षा अधिकारी, कार्यालय विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी कार्यालयों में शासन द्वारा लिपिकों के कितने-कितने पद स्वीकृत है, स्वीकृत पदों पर कौन-कौन लिपिक पदस्थ हैं, स्वीकृत कार्यरत रिक्त पदों की जानकारी पद सहित दी जावे। (ग) कार्यालय जिला शिक्षा अधिकारी जबलपुर में किन लिपिकों के तीन वर्षों से अधिक की अवधि से पदस्थ होने के बाद भी स्थानांतरण क्यों नहीं किये गये? कारण सहित जानकारी दी जावे। शासन के आदेशों की अवहेलना करने वाले ऐसे अधिकारी एवं कर्मचारियों के विरूद्ध कार्यवाही क्यों नहीं की गई? (घ) तीन वर्ष से एक ही स्थान पर पदस्थ जिला एवं संभागीय कार्यालयों के लिपिकों के विभागों में फेरबदल/स्थानांतरण कब तक किए जावेंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। जी हाँ, सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 एवं 3 अनुसार है। (ग) जिला शिक्षा अधिकारी जबलपुर में 02 लिपिक 03 वर्ष से अधिक अवधि से कार्यरत है जिनकी सेवानिवृत्ति 06 माह से कम अवधि शेष है, को नियमानुसार छोड़कर शेष सभी लिपिकों के स्थानांतरण कर दिये गये है। शेषांश का प्रश्न उपस्थिति नहीं होता है (घ) शेष जिलों में र्कायवाही प्रचलन में है। यह एक सतत प्रक्रिया है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
पुरानी तकनीकी की एक्स-रे मशीनों से मरीजों की जाँच
[चिकित्सा शिक्षा]
20. ( क्र. 611 ) श्रीमती प्रतिभा सिंह : क्या राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश के किन-किन मेडिकल कॉलेजों में आधुनिक तकनीकी की डिजीटल एक्स-रे मशीनें लगाई जा चुकी हैं? किन-किन मेडिकल कॉलेजों में अब तक डिजीटल एक्स-रे मशीनों के स्थान पर पुरानी तकनीकी की मशीनों से ही जाँच की जा रही है? उनमें डिजीटल एक्स-रे मशीनें कब तक लगाई जावेंगी? (ख) डिजीटल एक्स-रे मशीन से जांचें न कर अधिकतर जांचें पुरानी तकनीकी की एक्स-रे मशीनों से क्यों की जा रही हैं? क्या शासन गरीब मरीजों के बेहतर इलाज हेतु आधुनिक एक्स-रे मशीनों से ही एक्स-रे जाँच करने के निर्देश देगा? नहीं तो क्यों?
राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा ( एडवोकेट शरद जैन ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट पर है। चिकित्सा महाविद्यालय, ग्वालियर के लिए डिजिटल एक्स-रे मशीन क्रय किये जाने की कार्यवाही प्रचलन में है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ख) चिकित्सा महाविद्यालयों में दोनों पद्धति से एक्स-रे किये जा रहे है। चिकित्सा महाविद्यालयों के विभिन्न विभागों में ईलाज करने वाले चिकित्सकों द्वारा मरीजों के पर्चे पर उल्लेखानुसार डिजिटल या नॉन डिजिटल एक्स-रे की जाँच, मांग के अनुसार की जाती है। अतः शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्कूलों में बाउंड्रीवॉल निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
21. ( क्र. 612 ) श्रीमती प्रतिभा सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बरगी वि.स. क्षेत्र के किन-किन हाई स्कूल हा.से. स्कूलों में बाउंड्रीवॉल नहीं है? क्या बाउंड्रीवॉल नहीं होने से छात्रों-छात्राओं एवं शिक्षकों को अध्ययन/अध्यापन में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है? (ख) बाउंड्रीवॉल विहीन उक्त हा.से./हाई स्कूलों हेतु बाउंड्रीवॉल का निर्माण कब तक स्वीकृत किया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। बाउंड्रीवॉल न होने से छात्र छात्राओं एवं शिक्षकों को अध्ययन/अध्यापन करने में कठिनाइयों का सामना करने संबंधी कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। (ख) बाउंड्रीवॉल निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
विभिन्न शासकीय चिकित्सालयों में रिक्त पदों को पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
22. ( क्र. 645 ) श्री रामनिवास रावत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जनवरी 2017 की स्थिति में चम्बल संभाग अंतर्गत विभिन्न शासकीय चिकित्सालयों में विभिन्न श्रेणी के चिकित्सकों, विशेषज्ञ चिकित्सकों एवं अन्य पैरामेडिकल स्टॉफ के कितने पद स्वीकृत हैं, कितने पद भरे हैं? कितने पद कब से रिक्त हैं? जिलेवार, तहसीलवार चिकित्सा केन्द्रवार जानकारी दें? उक्त रिक्त पदों को भरने हेतु शासन की क्या योजना है? कब तक रिक्त पदों को भर दिया जावेगा? (ख) श्योपुर एवं मुरैना जिले में ऐसे कितने स्वास्थ्य केंद्र हैं जो पूर्णत चिकित्सक विहीन हैं? स्वास्थ्य केन्द्रवार जानकारी दें? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार विभिन्न चिकित्सालयों में चिकित्सकों एवं अन्य पैरामेडिकल स्टाफ के रिक्त पदों पर पदस्थापना हेतु प्रश्नकर्ता द्वारा मान. मुख्यमंत्री जी, प्रमुख सचिव स्वास्थ्य एवं आयुक्त स्वास्थ्य विभाग, म.प्र. शासन को दिनांक 30.09.16 को लिखे गए पत्रों पर क्या कार्यवाही की गई? कब तक जिला श्योपुर एवं मुरैना के चिकित्सकविहीन स्वास्थ्य केन्द्रों सहित अन्य चिकित्सालयों में रिक्त चिकित्सकों एवं अन्य पैरा मेडिकल स्टाफ के पदों पर नियुक्ति कर दी जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। विभाग रिक्त पदों की पूर्ति हेतु निरंतर प्रयास कर रहा है, चिकित्सा अधिकारी के 1896 पदों हेतु साक्षात्कार की कार्यवाही प्रचलन में है तथा पैरामेडिकल संवर्ग के 910 पदों की पूर्ति हेतु प्रोफेशनल एक्जामिनेशन बोर्ड को मांग पत्र प्रेषित किया गया है। चयन सूची प्राप्त होने पर उपलब्धता अनुसार पदस्थापना की कार्यवाही की जा सकेगी। पदपूर्ति हेतु निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है। (ख) मुरैना जिले अंतर्गत 04 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र 1. गलेथा, 2. किर्रायच, 3. महुआ एवं 4. बारा चिकित्सक विहिन है। जिला श्यौपुर अंतर्गत कोई संस्था चिकित्सक विहिन नहीं है। (ग) विभाग रिक्त पदों की पूर्ति हेतु निरंतर प्रयास करता है परंतु सीमित मात्रा में चिकित्सक/स्टॉफ की उपलब्धता के कारण शतप्रतिशत पदपूर्ति में कठिनाई हो रही है। उत्तरांश ’’क’’ अनुसार पदपूर्ति हेतु नियमित भर्ती की प्रक्रिया प्रचलन में है, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र खोले जाने की घोषणा का पालन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
23. ( क्र. 646 ) श्री रामनिवास रावत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला श्योपुर अंतर्गत कितने नवीन उपस्वास्थ्य केंद्र खोलने, कितने उपस्वास्थ्य केन्द्रों को प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में उन्नयन किये जाने के प्रस्ताव शासन के समक्ष विचाराधीन हैं? सूची सहित विकासखंडवार जानकारी दें? (ख) क्या दिनांक 18-07-14 को तत्कालीन स्वास्थ्य मंत्री जी द्वारा विजयपुर विधानसभा क्षेत्र के ग्राम रघुनाथपुर में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र खोले जाने की घोषणा की थी? यदि हाँ, तो अभी तक उक्त घोषणा पूर्ण क्यों नहीं हुई है? कब तक उक्त घोषणा को पूर्ण कर दिया जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) केवल 02 उप स्वास्थ्य केन्द्रों (मानपुर विकासखण्ड श्योपुर एवं रघुनाथपुर विकास खण्ड़ विजयपुर) का प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में उन्नयन का प्रस्ताव परियोजना परीक्षण समिति के अनुमोदन हेतु प्रक्रियाधीन है। (ख) जी हाँ। प्रश्नांश (क) के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
व्यावसायिक पाठ्यक्रम प्रारंभ किया जाना
[स्कूल शिक्षा]
24. ( क्र. 669 ) श्रीमती नंदनी मरावी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के अता. प्रश्न संख्या-81 (क्रमांक 2058) दिनांक 25/07/2016 में अवगत कराया गया था कि उत्कृष्ट विद्यालय पं.वि.द.उ.मा.विद्यालय सिहोरा में कृषि एवं वाणिज्य संकाय एवं अन्य व्यावसायिक पाठ्यक्रम आरंभ किये जाने हेतु बजट प्रावधान एवं सक्षम स्वीकृति पर निर्भर है। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार उत्कृष्ट विद्यालय में स्थानीय छात्रों की मांग एवं आवश्यकता के अनुरूप पाठ्यक्रम कब से आरंभ किये जायेंगे। कौन-कौन से पाठ्यक्रम प्रारंभ किया जाना प्रस्तावित हैं।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। कृषि एवं वाणिज्य की स्वीकृति बजट प्रावधान पर निर्भर करेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
व्याख्याताओं को 22 डी का लाभ दिये जाना
[स्कूल शिक्षा]
25. ( क्र. 673 ) श्रीमती नंदनी मरावी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश दिनांक 31/08/2004 में अधिपाठक पद पर रहते हुये वरिष्ठ वेतनमान 6500-10500 प्राप्त करने के पश्चात् व्याख्याता पद पर पदोन्नत किया गया है उन्हें कार्यभार ग्रहण करने के दिनांक से 22 डी का लाभ दिये जाने के निर्देश हैं। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार जबलपुर जिला अंतर्गत आदेश दिनांक से प्रश्नांश दिनांक तक कितने कर्मचारियों को इसका लाभ दिया गया? कितने कर्मचारियों को अभी तक इनका लाभ नहीं दिया गया? इन वंचित कर्मचारियों को कब तक लाभ दे दिया जायेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी नहीं। म.प्र. शासन, स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश क्रमांक एफ 7-17/2000/20-4 भोपाल, दिनांक 31.08.2004 द्वारा आदेश दिये गये है कि स्कूल शिक्षा विभाग के अधीन शैक्षणिक संस्थाओं में प्रधानपाठक माध्यमिक विद्यालय से व्याख्याता पद पर पदोन्नति उपरांत वेतन निर्धारण मूलभूत नियम 22-डी का लाभ दिया जायेगा। यहाँ उल्लेखनीय है कि प्रधानपाठक माध्यमिक शाला एवं व्याख्याता पद दोनों का ही वेतनमान 5500-9000 शासन से स्वीकृत है। जिसमें नियम 22 डी के अनुसार वेतन निर्धारण करते हुये लाभ दिये जाने का प्रावधान है। (ख) प्रश्नांश ''क'' के प्रकाश में ''ख'' की जानकारी निरंक है।
औषधी प्रशासन अंतर्गत कार्यवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
26. ( क्र. 714 ) श्री मधु भगत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ड्रग्स विभाग बालाघाट द्वारा ड्रग एवं कास्मेटिक एक्ट 1940, खाद सुरक्षा और मानक अधिनियम, 2006 के संदर्भ में कौन-कौन से नियम परिपत्र निर्देश जारी किये गये एवं लागू हैं, उनकी प्रति बतायें और इनके पालन में 01 जनवरी 2013 से 31.12.2016 तक क्या-क्या कार्यवाही अर्थात् निरीक्षण छापे, नमूने, जाँच सेम्पल इत्यादि प्राप्त किये गये? (ख) जिले में किस-किस के नाम से कौन-कौन सी औषधी केन्द्र कहाँ-कहा पर हैं, क्षेत्रफल एरिया लायसेंसधारी द्वारा की गई कागजी कार्यवाही की प्रतिलिपि सहित किस-किस मेडिकल की जाँच किसके द्वारा कब की गई तथा क्या कार्यवाही हुई जानकारी प्रदाय करें? उपरोक्त नियम अधिनियम तथा विभाग द्वारा जारी परिपत्रों के प्रावधान अनुसार उपरोक्त अवधि में किस-किस फर्म के विरूद्ध क्या-क्या कार्यवाही की गई? (ग) बालाघाट जिले अंतर्गत उपरोक्त अधिनियम, नियमों के क्रिन्यावयन हेतु कौन-कौन से शासकीय सेवक कितने वर्ष से नियुक्त एवं पदस्थ हैं? इनके द्वारा क्या-क्या कार्यवाही कब-कब किसके-किसके विरूद्ध की गई? क्या उपरोक्त शासकीय सेवकों के विरूद्ध पक्षपात करने, मनमानी करने, भ्रष्टाचार करने, निर्धारित टारगेट अनुसार कार्यवाही न करने की जानकारी विभाग के संज्ञान में है? यदि हाँ, तो क्या-क्या किस-किस के विरूद्ध? नाम, पद बतायें? (घ) क्या एक ही स्थान पर लगातार तीन वर्षों से पदस्थ कर्मचारी/अधिकारी को अन्यत्र पदस्थ किया जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) ड्रग विभाग बालाघाट को औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, 1940 एवं नियमावली, 1945 के नियम जारी करने का कोई अधिकार नहीं है। अपितु औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, 1940 के नियम बनाने एवं संशोधन का अधिकार केवल भारत सरकार को ही प्रदत्त है। भारत सरकार द्वारा बनाये गये इन नियमों का क्रियान्वयन खाद्य एवं औषधि प्रशासन द्वारा किया जाता है। भारत सरकार द्वारा औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, 1940 के अंतर्गत बनाये गये नियमों के पालन हेतु निरीक्षण के दौरान औषधि निरीक्षकों द्वारा समय समय पर निर्देश दिये जाते हैं। एवं प्रश्नांश समयावधि में ड्रग विभाग बालाघाट द्वारा कोई भी परिपत्र जारी नहीं किया गया है। औषधि निरीक्षक बालाघाट द्वारा वर्ष 01 जनवरी 2013 से 31.12.16 तक जिला बालाघाट में स्थित औषधि विक्रय संस्थानों के कुल 1131 निरीक्षण किये गये जिनकी सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। वर्ष 01 जनवरी 2013 से 31.12.16 तक जिला बालाघाट में स्थित औषधि विक्रय संस्थानों के कुल जाँच/परीक्षण हेतु लिये गये नमूनों की संख्या 121 है जिनकी सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। एवं औषधि निरीक्षक बालाघाट द्वारा वर्ष 01 जनवरी 2013 से 31.12.16 तक बिना अनुज्ञप्तिधारी 02 औषधि विक्रय संस्थानों पर छापामार कार्यवाही की गई। खाद्य सुरक्षा और मानक अधिनियम, 2006 के अंतर्गत 595 नमूने एवं 3856 निरीक्षण किये गये। (ख) बालाघाट जिले में स्थित कुल 686 औषधि विक्रय संस्थान है जिनकी सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है। औषधि विभाग द्वारा जिला बालाघाट में औषधि विक्रय अनुज्ञप्तिधारी संस्थानों पर क्षेत्रफल संबंधी की गई कार्यवाही निरंक है एवं 01 जनवरी 2013 से 31.12.16 तक औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, 1940 एवं नियम, 1945 का पालन न किये जाने पर कुल 15 औषधि विक्रय संस्थानों को प्रदत्त औषधि विक्रय अनुज्ञप्तियाँ निलंबित की गई एवं कुल 421 औषधि विक्रय संस्थानों को प्रदत्त औषधि विक्रय अनुज्ञप्तियाँ निरस्त की गई। जिनका विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘द’ अनुसार है। खाद्य सुरक्षा और मानक अधिनियम, 2006 के अंतर्गत औषधि विक्रय संस्थानों से 32 खाद्य पदार्थों के नमूने लिये गये, जिनमें 27 नमूने अवमानक पाये गये। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ध अनुसार है। (ग) बालाघाट जिले में औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, 1940 एवं नियम, 1945 के क्रियान्वयन हेतु श्री शरद कुमार जैन, औषधि निरीक्षक जिनकी नियुक्ति दिनांक 16.09.13 एवं जिला बालाघाट में पदस्थापना दिनांक 28.02.14 हैं एवं की गई कार्यवाही का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- ‘अ’ ‘ब’ ‘स’ एवं ‘द’ अनुसार है। बालाघाट जिले में खाद्य सुरक्षा अधिकारी श्री वाजिद मोहिब दिनांक 26.02. 2009, शरद चंद्र साहू दिनांक 24. 09. 2008 तथा श्रीमती संध्या मार्को दिनांक 06. 10. 2008 से पदस्थ हैं। बालाघाट जिले में पदस्थ औषधि निरीक्षक/खाद्य सुरक्षा अधिकारियों के विरूद्ध इस प्रशासन में कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) राज्य शासन द्वारा समय-समय पर जारी स्थानांतरण नीति के अनुसार स्थानांतरण किये जाते हैं।
शाला भवनों का मरम्मतीकरण
[स्कूल शिक्षा]
27. ( क्र. 737 ) श्री रामकिशन पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र उदयपुरा अंतर्गत वर्तमान में ऐसे कितने प्राथ./माध्य./हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी विद्यालय हैं जो भवनविहीन हैं एवं कितने विद्यालयों के भवन जर्जर अवस्था में हैं? सूची उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार उक्त भवन विहीन/जर्जर भवन वाले विद्यालयों के नवीन भवन निर्माण हेतु शासन की कोई मंशा है तो अवगत करावें। (ग) विधानसभा क्षेत्र उदयपुरा अंतर्गत ऐसे कितने शाला भवन हैं जिनकी भूमि का सीमांकन कर अतिकमण मुक्त कराया गया है? अतिक्रमण मुक्त भूमि पर कितने विद्यालयों की बाउन्ड्रीवॉल का निर्माण कराया गया है, सूची उपलब्ध करावें। जिन विद्यालयों में बाउन्ड्रीवॉल नहीं है उन विद्यालयों में बाउन्ड्रीवॉल निर्माण की शासन की क्या योजना है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) भवनविहीन शासकीय हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। कोई भी शासकीय हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल जर्जर अवस्था में नहीं है। भवन विहीन एवं जर्जर अवस्था में प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार। (ख) हाई एवं हायर सेकेण्डरी विद्यालयों के भवन निर्माण की स्वीकृति बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा। भवनविहीन/जर्जर प्राथमिक एवं माध्यमिक विधालयों के नवीन भवन निर्माण के प्रस्ताव जिले की वार्षिक कार्ययोजना 2017-18 में भारत शासन से स्वीकृति प्राप्त करने हेतु शामिल किया गया है। (ग) विधानसभा क्षेत्र उद्यपुरा अन्तर्गत शालाओं की भूमि को अतिक्रमण से मुक्त कराने हेतु जिला कलेक्टर रायसेन द्वारा जिले के राजस्व अधिकारियों को पत्र दि. 04.05.2016 तथा दि. 06.02.2017 जारी किया गया है। प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल निर्माण हेतु जिले की वार्षिक कार्ययोजना वर्ष 2016-17 में शामिल किया गया था। भारत शासन से स्वीकृति अप्राप्त है। पुनः वर्ष 2017-18 में प्रस्ताव शामिल किया गया है। हाई एवं हायर सेकेण्डरी शाला भवनों की बाउण्ड्रीवॉल निर्माण की स्वीकृति बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा।
प्राचार्यों के रिक्त पदों की पूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
28. ( क्र. 778 ) श्री मुकेश नायक : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश में कितने सरकारी स्कूलों में प्राचार्य के पद रिक्त हैं और कितने स्कूलों में तदर्थ प्राचार्य कार्यरत हैं? (ख) इनमें पन्ना जिले के सरकारी स्कूलों में प्राचार्यों के रिक्त पदों की अलग से जानकारी दीजिये? (ग) प्राचार्यों के पद रिक्त रहने के क्या कारण हैं और इन रिक्त पदों को भरने के लिये क्या कार्यवाही की जा रही है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) पन्ना जिले में 51 प्राचार्य हाईस्कूल एवं 38 प्राचार्य हायर सेकेण्डरी स्कूल के पद रिक्त हैं। (ग) वर्तमान में पदोन्नति पर आरक्षण के संबंध में माननीय सर्वोच्च न्यायालय नई दिल्ली में प्रकरण विचाराधीन है, इसलिये पदोन्नति संबंधी कार्यवाही स्थगित होने के कारण पद रिक्त है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विद्यालयों में सामग्री का क्रय
[आदिम जाति कल्याण]
29. ( क्र. 780 ) श्री मुकेश नायक : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अजा.अ.ज.जा. एवं पिछड़ा वर्ग कल्याण विभाग द्वारा संचालित विद्यालयों में उपयोगार्थ सभी सामग्री के क्रय हेतु क्या-क्या नियम व प्रक्रिया निर्धारित है? नियमों की प्रति दी जावें। पन्ना जिले की पवई विधानसभा में कौन-कौन सी सामग्री किस प्रक्रिया अंतर्गत कितनी-कितनी मात्रा व राशि की क्रय की गई अथवा क्रय की जाना है, वित्तीय वर्ष 2013 से प्रश्न दिनांक तक की जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) क्या पन्ना जिले के विधानसभा पवई क्षेत्र अंतर्गत संचालित आश्रम/छात्रावासों में सामग्री क्रय हेतु नियमों का पालन किया गया? (ग) यदि हाँ, तो प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में किन –किन आश्रम/छात्रावासों द्वारा क्या क्या सामग्री क्रय की गई? क्रय सामान, मूल्य वर्ष, क्रय संस्था का नाम – पता आदि सहित जानकारी दी जावे?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) से (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
सिविल अस्पतालों में दवाओं की उपलब्धता
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
30. ( क्र. 812 ) श्री आशीष गोविंद शर्मा : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) खातेगांव विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत सिविल अस्पतालों में स्वीकृत पदों के अनुसार चिकित्सक कार्यरत है अथवा नहीं? (ख) क्या खातेगांव विधान सभा क्षेत्र की सिविल अस्पताल एवं प्रा.स्वा. केन्द्रों पर मरीजों को जो नि:शुल्क दवाइयां दी जाती है वह पर्याप्त मात्रा में है या नहीं? (ग) खातेगाँव विधान सभा क्षेत्र के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर डायबिटीज हेतु इन्सुलीन एवं जहरीले जानवरों के काटे जाने पर जो इन्जेक्शन लगाये जाते हैं, क्या वो पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है? (घ) अगर नहीं तो खातेगांव विधान सभा क्षेत्र में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर जंगली जानवर के काटने, कुत्ते के काटने के इन्जेक्शन इन केन्द्रों पर कब तक उपलब्ध होंगे?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) खातेगांव विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत सिविल अस्पताल, कन्नौद में विशेषज्ञों के 03 तथा चि.अ. के 02 पद स्वीकृत एवं 01 विशेषज्ञ व 06 चिकित्सा अधिकारी कार्यरत हैं। अतः कुल स्वीकृत 05 पदों के विरूद्ध 07 विशेषज्ञ/चिकित्सक कार्यरत हैं। विशेषज्ञों की अत्यधिक कमी के कारण 02 पद रिक्त हैं। (ख) जी हाँ, खातेगांव विधानसभा क्षेत्र में सिविल अस्पताल एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर मरीजों को वितरीत की जाने वाले दवाइयाँ पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध हैं। (ग) जी हाँ। (घ) उत्तरांश ’’ग’’ के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
बालक बालिका छात्रावास के अधीक्षक/अधीक्षिका का प्रभार
[अनुसूचित जाति कल्याण]
31. ( क्र. 818 ) श्री आशीष गोविंद शर्मा : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) देवास जिले के अंतर्गत कितने अनु.जाति/आदिवासी बालक-बालिका (हायर सेकेण्डरी/हाई स्कूल/ मा.वि./प्रा.वि.) छात्रावास वर्तमान में संचालित है संख्या बतावें? (ख) खातेगांव विधान सभा क्षेत्र के अंतर्गत ऐसे कितने बालक-बालिका छात्रावास है जहाँ पर पदस्थ अधीक्षक-अधीक्षिका के पास एक से अधिक छात्रावास प्रभार है उनका नाम बतावें। (ग) विभाग/ शासन द्वारा अधीक्षक अधीक्षिका को हेडक्वार्टर पद निवास करने हेतु आदेशित किया गया है तो एक ही व्यक्ति 02 स्थानों पर कैसे निवास करेगा? (घ) खातेगांव विधानसभा क्षेत्र के बालक-बालिका छात्रावासों में एक से अधिक छात्रावासों का प्रभार दिये जाने संबंधी आदेश किस अधिकारी द्वारा दिया गया है अधिकारी का नाम बतावें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) देवास जिले के अंतर्गत आदिवासी के 16 बालक एवं 9 कन्या छात्रावास/आश्रम तथा अनुसूचित जाति के 21 बालक तथा 22 कन्या छात्रावास/ आश्रम संचालित हैं। (ख) विभागान्तर्गत देवास जिले में खातेगांव विधानसभा क्षेत्रांतर्गत वर्तमान में किसी भी अधीक्षक के पास एक से अधिक छात्रावास का प्रभार नहीं है। (ग) एवं (घ) प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्वास्थ्य सुविधाओं में सुधार व विस्तार
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
32. ( क्र. 847 ) श्री अशोक रोहाणी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश शासन ने जिला जबलपुर की स्वास्थ्य सुविधाओं में सुधार, विस्तार व मरीजों के बेहतर इलाज हेतु कहाँ-कहाँ पर आधुनिक सुविधाएं संसाधन उपकरण उपलब्ध कराये है वर्ष 2014-15 से 2016-17 तक की जानकारी दें? (ख) जबलपुर शहर के किन-किन चिकित्सालयों/सिविल चिकित्सालयों में स्वीकृत पद संरचना के तहत कौन-कौन से पद कब से रिक्त है एवं क्यों? इन रिक्त पदों की पूर्ति हेतु शासन ने क्या प्रयास किये हैं। पैरामेडिकल व नर्सिंग स्टाफ की क्या स्थिति है? (ग) क्या सिविल चिकित्सालय रांझी में चिकित्सा व स्वास्थ्य संबंधी सुविधाएं व्यवस्थाएं पर्याप्त व संतोषजनक हैं कौन-कौन से संसाधन/उपकरणों की आवश्यकता है? इसकी पूर्ति हेतु शासन ने क्या प्रयास किये हैं? कौन-कौन से स्वीकृत पदों की पूति नहीं की गई हैं एवं क्यों?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-”अ” अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-”ब” अनुसार है। प्रदेश में चिकित्सकों/विशेषज्ञों की अत्याधिक कमी है अतः रिक्त पदों की पूर्ति नहीं की जा सकी है तथा स्वास्थ्य संस्थाओं के उन्नयन उपरांत नवीन स्वीकृत पद पदोन्नति नियम शून्य होने एवं कर्मचारियों के सेवानिवृत्त होने के कारण। चिकित्सा अधिकारियों की पदपूर्ति हेतु मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग के माध्यम से 1896 पदों के लिये साक्षात्कार की कार्यवाही प्रचलन में है एवं सीधी भर्ती के तहत वर्ष 2015-16 में व्यापम के माध्यम से चयन उपरांत पैरामेडिकल संवर्ग के कर्मचारियों की नियुक्तियां की गई है। जबलपुर शहर के चिकित्सालयों में पैरामेडिकल व नर्सिंग स्टाफ की स्थिति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-”ब” अनुसार है। (ग) जी हाँ, आवश्यकतानुसार संसाधन/उपकरण उपलब्ध है। प्रश्न उपस्थित नहीं होता। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-”अ” तथा ”ब” अनुसार है, प्रश्नांश (ख) के उत्तर अनुसार।
पैथालाजी जाँच संबंधी उपकरण
[चिकित्सा शिक्षा]
33. ( क्र. 848 ) श्री अशोक रोहाणी : क्या राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नेताजी सुभाषचंद्र बोस चिकित्सा महाविद्यालय जबलपुर में पैथालॉजी जाँच संबंधी कौन-कौन सी सुविधाएं संसाधन उपकरण हैं पैथालॉजी विभाग में कौन-कौन सा कितना स्टाफ स्वीकृत व पदस्थ है तथा कौन-कौन कब से किस पद पर पदस्थ है? सूची दें? (ख) प्रश्नांश (क) में पैथालॉजी जाँच हेतु टेण्डर प्रक्रिया कब से किसके आदेश से निर्धारित की गई है एवं क्यों? किन-किन जाँचों से संबंधित टेण्डर कब-कब किसके आदेश से निकाला गया एवं किन- किन जाँचों से संबंधित किस-किस का टेण्डर कब किन शर्तों पर कितनी अवधि के लिए स्वीकृत किया गया? किस-किस के टेण्डर की अवधि कब-कब किसके आदेश से बढ़ाई गई एवं क्यों वर्ष 2014 -15 से 2016-17 तक की जानकारी दें? (ग) प्रश्नांश (क) में पदस्थ किन-किन कर्मचारियों के परिवारजनों के सदस्यों के नाम से किन-किन जाँचों से संबंधित टेण्डर कब किसने स्वीकृत किये हैं एवं क्यों इस संबंध में म.प्र. सिविल सेवा (आचरण) नियम 1965 के नियम 16 (क) (ख) एवं (ग) में शासकीय सेवकों के संबंध में क्या प्रावधान हैं? क्या शासन इसकी जाँच कराकर दोषी अधिकारियों पर कार्यवाही करेगा?
राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा ( एडवोकेट शरद जैन ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक एवं दो अनुसार है। (ख) चिकित्सा महाविद्यालय, जबलपुर द्वारा सक्षम स्तर से लिये गये निर्णय उपरांत संयुक्त संचालक एवं अधीक्षक, चिकित्सा महाविद्यालय सम्बद्ध चिकित्सालय, जबलपुर द्वारा वित्तीय वर्ष 2013-14 के लिये संचालक विज्ञापन शाखा, जनसम्पर्क संचालनालय, बाणगंगा रोड, मध्यप्रदेश भोपाल के माध्यम से खुली निविदा जारी की गई है। निविदा में स्वीकृत की गई फर्मों एवं जाँच की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-तीन एवं चार अनुसार है। वित्तीय वर्ष 2015-16 में www.mpeproc.gov.in के माध्यम से पैथोलॉजी जाँच हेतु आउटसोर्स के माध्यम से कराये जाने हेतु दो बार निविदा जारी की गई, किन्तु दोनों आमंत्रणी में किसी भी फर्म द्वारा निविदा की शर्तों की पूर्ति नहीं किये जाने के कारण निविदा को निरस्त कर दिया गया। नई निविदा लागू होने तक पूर्व में की गई निविदा की शर्तों में दिये गये प्रावधान के अनुसार नई निविदा लागू होने तक निविदा को जारी रखा जायेगा, का पालन करते हुये कार्यालय द्वारा जारी आदेश क्रमांक 720 दिनांक 01 जनवरी, 2014 को निरन्तर जारी रखा गया है। (ग) किसी भी कर्मचारियों के परिवारजनों के सदस्यों के नाम के किसी भी टेण्डर को जारी नहीं किया गया। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी द्वारा अनियमितता
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
34. ( क्र. 860 ) श्री रामलाल रौतेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अनूपपुर जिले में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा वित्तीय वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 तक मटेरियल, उपकरण खरीदी हेतु कितनी राशि व्यय की गई है? (ख) प्रश्नांश (क) में खरीदी के लिए किन-किन समाचार पत्रों में विज्ञापन निकलवाया गया है इस प्रक्रिया में किन-किन फर्मों ने भाग लिया है तथा किन्हें सप्लाई का आदेश मिला?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) अनूपपुर जिले में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा वित्तीय वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 तक मटेरियल, उपकरण खरीदी हेतु राशि व्यय की गई है की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र –‘’अ’’ अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) में राज्य स्तर से क्रय हेतु टेण्डर नियमानुसार म.प्र. पब्लिक हेल्थ सर्विसेस कारर्पोरेशन लिमिटेड भोपाल द्वारा ऑनलाइन किया जाता है एवं स्थानीय स्तर की खरीदी के लिए जिन समाचार पत्रों में विज्ञापन निकलवाया गया है व इस प्रक्रिया में जिन फर्मों ने भाग लिया है तथा जिन्हें सप्लाई का आदेश मिला की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र –‘’ब’’ अनुसार है।
कन्या हायर सेकेण्डरी स्कूल का उन्नयन
[स्कूल शिक्षा]
35. ( क्र. 893 ) श्री राजेन्द्र फूलचंद वर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विभाग प्रदेश के नौनिहाल छात्र-छात्राओं के उज्जवल भविष्य के लिए समय-समय पर स्कूलों का उन्नयन करता है? यदि हाँ, तो विगत 5 वर्षों में सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र में कितने और कहाँ-कहाँ पर किन-किन वर्ग में स्कूलों का उन्नयन किया गया है? (ख) क्या शासन द्वारा नगर पिपलरांवा में विगत 30 वर्षों से चल रहे शासकीय हाई स्कूल को कन्या हायर सेकेण्ड्री स्कूल में उन्नयन करने हेतु कोई कार्यवाही प्रचलित है या नहीं? यदि हाँ, तो क्या और नहीं तो स्पष्ट करें। (ग) क्या शासन पिपलरावा वा आस-पास के क्षेत्र के लगभग 20-25 ग्रामों की सैकड़ों बालिकाओं को कक्षा 10वीं के पश्चात् हायर सेकेण्डरी स्कूल में अध्ययन हेतु आ रही समस्याओं के निराकरण हेतु भविष्य में पिपलरांवा को कन्या हायर सेकेण्डरी स्कूल की सौगात दी जावेगी या नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : क) जी हाँ। वर्ष 2013-14 में प्राथमिक विद्यालय सकतली को माध्यमिक शाला में उन्नयन किया गया है। माध्यमिक शाला से हाईस्कूल एवं हाई स्कूल से हायर सेकेण्डी स्कूलों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट पर है। (ख) एवं (ग) शासकीय कन्या हाईस्कूल पीपलरावां निर्धारित मापदण्ड अनुसार पात्र न होने से कार्यवाही प्रचलित नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मिडिल स्कूल से हाई स्कूल में उन्नयन
[स्कूल शिक्षा]
36. ( क्र. 931 ) श्री मोती कश्यप : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वर्ष 2014-15 की अवधि में रा.मा.शि. मिशन के अंतर्गत विभागीय और जिला प्रशासन के किन आदेशानुसार वि.स.क्षे. बड़वारा के वि.खं. बड़वारा, कटनी एवं ढीमरखेड़ा के किन मिडिल स्कूल को हाई स्कूल में उन्नयन किया गया है? (ख) प्रश्नांश (क) में से कौन-कौन से हाई स्कूलों में वर्तमान में कितने छात्र अध्ययनरत हैं? (ग) क्या प्रश्नांश (क), (ख) विद्यालयों के भवन निर्माण की स्वीकृतियां किन आदेशों द्वारा प्रदान कर दी गई है? (घ) प्रश्नांश (ग) के किन-किन विद्यालयों के भवनों के निर्माण की प्रक्रिया प्रारंभ कर दी गई है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) वर्ष 2014-15 की अवधि में राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान के तहत माध्यमिक स्कूल से हाईस्कूल में इस क्षेत्र में उन्नयन नहीं किया गया। (ख) से (घ) उत्तरांश 'क' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
हाईस्कूल से हायर सेकेण्डरी में उन्नयन
[स्कूल शिक्षा]
37. ( क्र. 932 ) श्री मोती कश्यप : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या माह अगस्त-सितम्बर 2016 की माननीय मुख्यमंत्री जी की जनदर्शन यात्रा के दौरान वि.स.क्षे. बड़वारा के वि.खं. बड़वारा, कटनी एवं ढीमरखेड़ा के किन-किन मिडिलस्कूल को हाईस्कूल एवं हाईस्कूल को हायर सेकेण्डरी स्कूल के रूप में उन्नयन करने की घोषणा की है? (ख) प्रश्नांश (क) के किन उन्नयित विद्यालयों को प्रारंभ कर दिया गया है? (ग) क्या प्रश्नांश (क) घोषित विद्यालयों में से किन्हीं हाईस्कूलों एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल को किन्हीं आधार पर अपात्र मानकर निरस्त कर दिया गया है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। (ग) 'ख' के संदर्भ में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
वक्फ बोर्ड की संपत्तियां
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
38. ( क्र. 940 ) श्री जितेन्द्र गेहलोत : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) मध्य प्रदेश में वक्फ बोर्ड के अंतर्गत पूरे प्रदेश में वक्फ पंजीकृत संपत्त्तियों का ब्यौंरा क्या है? (ख) वक्फ बोर्ड में पंजीकृत कृषि भूमियों में से कितनी एवं कौन-कौन सी भूमियों पर किस-किस के द्वारा अतिक्रमण किया गया है? बोर्ड ने अतिक्रमणकर्ताओं के विरूद्ध अब तक क्या-क्या कार्यवाही की? ब्यौरा दें। (ग) म.प्र. वक्फ बोर्ड द्वारा किन-किन मस्जिदों, मदरसों, दारूल उलूम, दरगाहों, कब्रिस्तान की व्यवस्था, विकास आदि के लिए विगत तीन वर्षों में कितना अनुदान व ऋण स्वीकृत किया एवं कितने अनुदान व ऋण के कौन-कौन से प्रस्ताव सेंट्रल वक्फ कौंसिल को भेजे?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''एक'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''दो'' अनुसार है। अतिक्रमणकारियों के विरूद्ध वक्फ अधिनियम की धारा 54 के अंतर्गत कार्यवाही की गई। (ग) मध्यप्रदेश वक्फ बोर्ड द्वारा किसी मस्जिद, मदरसा, दारूल उलूम, दरगाह, कब्रिस्तान की व्यवस्था एवं विकास आदि के लिये विगत तीन वर्षों में कोई अनुदान व ऋण स्वीकृत नहीं किया गया है एवं न ही किसी वक्फ को अनुदान व ऋण दिये जाने हेतु विगत तीन वर्षों में कोई प्रस्ताव सेन्ट्रल वक्फ कौंसिल को भेजा गया है।
मुरैना श्योपुर में दुर्घटनाओं में मृतकों के आश्रितों को नियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
39. ( क्र. 965 ) श्री सत्यपाल सिंह सिकरवार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या आवेदक रामनरेश शर्मा पुत्र हाकिम सिंह निवासी नगर पालिका के पीछे जौरा मुरैना की माताजी का निधन दिनांक 11.09.1983 को क्वारी नदी दुर्घटना में विजयपुर (श्योपुर) में हो गया था? (ख) क्या म.प्र.शासन द्धारा पत्र क्रं. डी.क./1758/01/13183 दिनांक 6 जनवरी 1984 को मृतक परिवार के एक सदस्य को शासकीय नौकरी दी जावेगी घोषणा की गई थी? (ग) क्या राम अवतार त्रिवेदी पुत्र गोपीलाल द्वारा मृतिका सुशीला देवी का भतीजा बनकर फर्जी तरीके से उत्तराधिकारी बनकर शिक्षक के पद पर नियुक्ति विजयपुर जिला श्योपुर में ले ली थी। जिसे श्योपुर कलेक्टर द्वारा दिनांक 24.03.2007 को निरस्त कर दिया था उस पर शासन द्वारा क्या कार्यवाही की गई? (घ) क्या मृतिका सुशीलादेवी के पुत्र रामनरेश शर्मा द्धारा म.प्र. उच्च न्यायालय खण्डपीठ ग्वालियर में रिट पिटीशन क्रं. 4061/2007 दायर की गई थी। जिसमें माननीय उच्च न्यायालय द्धारा यह निर्देश दिये गये थे कि याचिकाकर्ता से एक नया अभ्यावेदन लेकर तीन माह के भीतर उचित स्थान पर नियुक्ति करें शासन द्धारा न्यायालय के आदेश पर क्या अमल किया जानकारी दी जावे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) श्री एस.एस.तोमर, प्रभारी अधिकारी स्थापना, कार्यालय कलेक्टर, जिला श्योपुर द्वारा पत्र क्रमांक/शिका./75-6/2007 श्योपुर दिनांक 24.03.2007 के द्वारा मान. कलेक्टर श्योपुर को प्रकरण की वस्तुस्थिति का प्रतिवेदन भेजा गया। प्रतिवेदन की छाया प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (घ) जी हाँ। प्रश्नांकित रिट पिटीशन में माननीय न्यायालय द्वारा दिये गये निर्देशों पर श्री राम अवतार त्रिवेदी द्वारा मान. उच्च न्यायालय ग्वालियर बेन्च में रिव्यू पिटीशन 515/2016 दायर कर न्यायालयीन निर्णय दिनांक 13-12-2016 पर अबेन्स (Abeyance order) प्राप्त किया गया। वर्तमान में प्रकरण माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ ग्वालियर में प्रचलन में है।
राज्य बीमारी सहायता शिविर
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
40. ( क्र. 968 ) श्री सत्यपाल सिंह सिकरवार : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मुरैना जिले में वर्ष 2015-16 में कितने राज्य बीमारी सहायता शिविर लगाये गये? विधानसभा क्षेत्रवार संख्या सहित जानकारी दी जावे। (ख) उक्त स्वास्थ्य शिविरों में कितने मरीजों का उपचार कराया गया? पूर्ण जानकारी संख्या सहित दी जावें। (ग) उक्त अवधि में गंभीर बीमारी से पीडि़त मरीजों को कितनी आर्थिक सहायता प्रदान की गई? विधानसभावार मरीजों के नाम, पते, राशि सहित पूर्ण जानकारी दी जावें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) मुरैना जिले में वर्ष 2015-16 में पृथक से राज्य बीमारी सहायता निधि योजना अन्तर्गत मरीजों के चिन्हांकन हेतु विभाग द्वारा कोई शिविर आयोजित नहीं किये गये। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) उपरोक्त के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
दो से अधिक संतानों वाले कर्मचारियों हेतु परिश्रम
[स्कूल शिक्षा]
41. ( क्र. 999 ) डॉ. मोहन यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) स्कूल शिक्षा विभाग में जनवरी 2001 से प्रश्न दिनांक तक दो से अधिक संतान वाले समस्त कर्मचारियों के लिए कौन-कौन से पत्र एवं परिपत्र जारी किये गये? (ख) प्रश्नांश (क) के अनुसार जनवरी 2001 से प्रश्न दिनांक तक उज्जैन जिले के सभी कार्यालयों में पदस्थ कर्मचारियों के दो या दो से अधिक संतानों के संबंध में जानकारी उपलब्ध करायें? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) की जानकारी अनुसार वर्ष 2001 के पश्चात् समस्त कर्मचारियों के लिए नियम बंधनकारी है? (घ) यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा कोई परिपत्र जारी नहीं किया है। सामान्य प्रशासन विभाग का राजपत्र दिनांक 10 मार्च, 2000 द्वारा शासकीय सेवा में दिनांक 26 जनवरी, 2001 को या पश्चात् दो से अधिक संतान वाले उम्मीदवार किसी सेवा या पद पर नियुक्ति के लिए पात्र नहीं होने का उल्लेख है। (ख) जिले के कार्यालयों में पदस्थ ऐसे कर्मचारी जिनके दो या दो से अधिक संतान की जानकारी संलग्न परिशिष्ट में है। (ग) जी हाँ। (घ) प्रश्नांश (ग) के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों में रिक्त पद व सुविधाएं
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
42. ( क्र. 1049 ) श्री दुर्गालाल विजय : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) श्योपुर विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत वर्तमान में शहरी डिस्पेंसरी सहित कौन-कौन से प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र कहाँ-कहाँ संचालित हैं, इनमें शासन निर्देशानुसार चिकित्सकों/ अन्य स्टॉफ के कौन-कौन से पद स्वीकृत/भरे/कब से रिक्त पड़े हैं, कितनी प्रकार की जांचे/अन्य सुविधाएं उपलब्ध/अनुपलब्ध हैं, केन्द्रवार जानकारी देवें? (ख) उक्त केन्द्रों में उक्त रिक्त पदों को न भरने का कारण व कब तक भरे जावेंगे तथा अनुपलब्ध सुविधाएं कब तक उपलब्ध कराई जावेगी केन्द्रवार जानकारी देवें? (ग) क्या श्योपुर शहर स्थित डिस्पेंसरी में चिकित्सक का पद माह जुलाई 2016 से रिक्त पड़ा है तब से प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र राडेप में पदस्थ चिकित्सक सप्ताह में दो दिन यहा ड्यूटी करते हैं शेष दिनों में डिस्पेंसरी एक स्टॉफ नर्स व सफाईकर्मी के भरोसे संचालित हो रही है? (घ) उक्त स्थिति में प्रा.स्वा. केन्द्र राड़ेप सप्ताह में दो दिवस तथा उक्त डिस्पेंसरी चार दिवस चिकित्सक विहीन रहती है नतीजन मरीजों को परेशानी आती है और वे उपचार हेतु अन्यत्र जाने को विवश होते है यदि हाँ, तो क्या शासन उक्त डिस्पेंसरी में नियमित चिकित्सक की व्यवस्था तत्काल की जावेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) श्यौपुर विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत स्वीकृत, कार्यरत एवं रिक्त पदों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन अंतर्गत शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र स्तर की संस्था में संविदा चिकित्सक/स्टॉफ के पद स्वीकृत हैं। सुविधाओं के संबंध में जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’ब’’ अनुसार है। प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, राडेप एवं दुर्गापुरी, श्यौपुर में लैब टेक्नीशियन कार्यरत न होने के कारण केवल 05 प्रकार की जाँच सुविधा उपलब्ध है। (ख) प्रदेश में विशेषज्ञ/चिकित्सकों की कमी है, विभाग रिक्त पदों की पूर्ति हेतु निरंतर प्रयास कर रहा है, चिकित्सा अधिकारी के 1896 पदों हेतु साक्षात्कार की कार्यवाही प्रचलन में है तथा पैरामेडिकल संवर्ग के 910 पदों की पूर्ति हेतु प्रोफेशनल एक्जामिनेशन बोर्ड को मांग पत्र प्रेषित किया गया है। चयन सूची प्राप्त होने पर उपलब्धता अनुसार पदस्थापना की कार्यवाही की जा सकेगी। प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र स्तर की संस्थाओं में चिकित्सा अधिकारी के पद स्वीकृत होते हैं एवं प्रदेश में चिकित्सकों की कमी श्यौपुर जिले में संचालित प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों में मापदण्ड अनुसार प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों स्तर पर उपलब्ध होने वाली समस्त स्वास्थ्य सुविधाऍ उपलब्ध हैं। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी से प्राप्त मांगपत्र अनुसार सुविधाऍ प्रदान किए जाने की कार्यवाही निरंतर जारी रहती है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं। दिनांक 08.02.2016 से डॉ. राखी मीणा, संविदा चिकित्सक की नियुक्ति की गई है एवं वे निरंतर कार्यरत हैं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश ’’ग’’ के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नेत्र आपरेशनों की सुविधा का अभाव
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
43. ( क्र. 1050 ) श्री दुर्गालाल विजय : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) श्योपुर जिला चिकित्सालय में प्रथम श्रेणी नेत्र विशेषज्ञ का पद दिनांक 30.09.2013 से रिक्त है इसका कारण व कब तक भरा जावेगा वर्ष 2012-13 से 2016-17 तक नेत्र ऑपरेशनों का वर्षवार निर्धारित लक्ष्य व लक्ष्य के विरूद्ध कितने ऑपरेशन किये। (ख) क्या जिले में पुराने चिकित्सालय परिसर में जिला स्तरीय 20 बिस्तरीय नेत्र वार्ड व नेत्र ओ.टी. बेहतर स्थिति में होने के बावजूद इसे एक वर्ष से अधिक समय से बंद कर दिये जाने एवं द्वितीय श्रेणी नेत्र चिकित्सक का स्थानांतरण हो जाने के कारण जिले में नेत्र ऑपरेशन सुविधा का अभाव है जिले के नेत्र रोगी परेशान है? (ग) क्या यह सही है कि उक्त वार्ड व नेत्र ओ.टी. चालू रहने की स्थिति में प्रतिदिन दर्जनों रूटिन नेत्र ऑपरेशन व नेत्र शिविरों के माध्यम से प्रतिवर्ष सैकड़ों नेत्र रोगियों के ऑपरेशन किये जाते थे वे अब बंद कर दिये गये व क्यों? (घ) क्या शासन उक्त वार्ड व नेत्र ओ.टी. को अविलंब पुन: प्रारंभ करवाएगा तथा प्रश्नांश (ग) अनुसार जिले के नेत्र रोगियों को नेत्र ऑपरेशनों की सुविधा उपलब्ध करवाएगा? यदि नहीं, तो क्यों?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जिला चिकित्सालय श्यौपुर में प्रथम श्रेणी नेत्ररोग विशेषज्ञ का एक पद दिनांक 30.09.2013 से रिक्त हैं परंतु नेत्ररोग योग्यता के एक द्वितीय श्रेणी चिकित्सा अधिकारी कार्यरत हैं। प्रदेश में विशेषज्ञों की अत्यधिक कमी के कारण तथा विशेषज्ञ का पद शतप्रतिशत पदोन्नति से भरने का प्रावधान होने के कारण, प्रथम श्रेणी विशेषज्ञ के रिक्त पद भरने में कठिनाई हो रही है। वर्ष वार ऑपरेशन के लक्ष्य एवं किए गए ऑपरेशन की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) हाँ यह सही है, कि पुराने चिकित्सालय परिसर में जिला स्तरीय 20 बिस्तरीय नेत्र वार्ड व नेत्र ओ.टी. बेहतर स्थिति में थे परन्तु पुराने अस्पताल परिसर से नवीन जिला चिकित्सालय की दूरी लगभग 2-3 कि.मी. की दूरी होने के कारण समस्या उत्पन्न होती थी जिसके कारण नेत्र ऑपरेशन वाले मरीजों को सामुचित सुविधा उपलब्ध कराने के उद्देश्य से नवीन जिला चिकित्सालय, श्योपुर में पृथक से बेहतर नेत्र ओ.टी., वार्ड स्थापित कर ओ.पी.डी. में आने वाले मरीजों की जाँच कर नेत्र ऑपरेशन किये जा रहे है तथा जिला स्तर पर नेत्र शिविर लगाकर भी मरीजों के ऑपरेशन किये जा रहे है। हाँ यह सही है कि द्वितिय श्रेणी नैत्र चिकित्सक का स्थानातरंण भिण्ड हो गया है लेकिन संबधित चिकित्सा अधिकारी को शासन निर्देशानुसार अभी तक कार्यमुक्त नहीं किया गया है व उनके द्वारा वर्तमान में नियमित ओ.पी.डी. में मरीजों का परीक्षण कर सफल नेत्र ऑपरेशन किये जा रहे है व किसी प्रकार की नेत्र ऑपरेशन में असुविधा नहीं है ना ही नेत्र रोगी परेशान है। (ग) जी नहीं, वर्तमान में नवीन जिला चिकित्सालय में प्रतिदिन नेत्र चिकित्सक द्वारा मरीजों का परीक्षण कर नेत्र ऑपरेशन किये जा रहे है एवं शिविर के माध्यम से भी मरीजों के नेत्र ऑपरेशन किये जा रहे है, नेत्र ऑपरेशन की प्रक्रिया पूर्व की भांति संचालित की जा रही है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी नहीं, नवीन चिकित्सालय भवन में वर्तमान में प्रचलित व्यवस्था में बेहतर कार्य संचालन किया जा रहा है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अन्त्या व्यवसायी बैंक मुरैना द्वारा ऋण वितरण
[अनुसूचित जाति कल्याण]
44. ( क्र. 1110 ) श्री बलवीर सिंह डण्डौतिया : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) म.प्र. शासन अनुसूचित जाति कल्याण विभाग द्वारा संचालित अन्त्या व्यवसायी बैंक द्वारा अनुसूचित जाति वर्ग के हितग्राहियों को ऋण/अनुदान के क्या नियम नीति बनाये गये हैं व उनके क्रियान्वयन हेतु क्या प्रक्रिया निर्धारित है? प्रति दी जावे। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में विभाग द्वारा किन-किन (अ.जा.) हितग्राही को ऋण/अनुदान देने में कोई प्राथमिकता है तो बताया जावे व क्या जिला अन्त्या व्यवसायी बैंक मुरैना द्वारा पात्र हितग्राहियों को ही ऋण/ अनुदान सहायता दी गई है? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) जनवरी 2014 से जनवरी 2017 तक अन्त्या व्यवसायी बैंक जिला मुरैना द्वारा जनपद पंचायत अम्बाह व मुरैना में कितने हितग्राहियों को ऋण/ अनुदान दिया गया है की जानकारी हितग्राही का नाम, पता देयक राशि, वर्ष, दिनांक, कार्य विवरण इत्यादि सहित प्रश्नांश (ग) में उल्लेखित समयावधि के अनुसार दी जावे।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 1, 2, 3 एवं 4 अनुसार है। (ख) अनुसूचित जाति वर्ग के बेरोजगार व्यक्तियों को ही ऋण एवं अनुदान बैंकों के माध्यम से उपलब्ध कराया गया है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 5 अनुसार है।
विमुक्त घुमक्कड़ जाति को कल्याणकारी योजनाएं
[विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति कल्याण]
45. ( क्र. 1111 ) श्री बलवीर सिंह डण्डौतिया : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या म.प्र.शासन विमुक्त घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति कल्याण विभाग द्वारा विभाग से संबंधित हितग्राहियों को जनहित व कल्याणकारी योजनाओं को देने के संबंध में जिला मुरैना को कोई भी राशि विगत एक वर्ष से नहीं भेजी गई है? यदि हाँ, तो क्यों? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित जाति समुदाय को उनकी हितग्राही योजनाओं का राशि के अभाव में उनके कार्य नहीं हो पाने से उनके लिए चलाई जा रही योजनाएं निरर्थक साबित हो रही है। (ग) क्या म.प्र. शासन प्रश्नांश (क) में उल्लेखित जाति समुदाय जो प्रदेश की सभी जातियों के निम्न वर्ग से संबंधित है, को लाभकारी योजनाओं को मूर्त रूप देने हेतु पर्याप्त राशि कब तक भेज दी जायेगी? (घ) क्या अनुसूचित जाति कल्याण विभाग मुरैना द्वारा उपरोक्त जाति वर्ग को राशि उपलब्ध कराने हेतु कई बार पत्र भी भेजे गए हैं? यदि हाँ, तो पत्रों का विवरण उपलब्ध करावे।
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) जी नहीं। जिला मुरैना को मध्यप्रदेश शासन, विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जनजाति विकास विभाग द्वारा विमुक्त जाति आवास योजना अंतर्गत वर्ष 2016-17 में 60 आवासों हेतु राशि रूपये 36.00 लाख उपलब्ध कराई गयी है। इसके अतिरिक्त मुरैना जिले को वर्ष 2016-17 में इस वर्ग हेतु संचालित 2 छात्रावासों के संचालन के लिये राशि रूपये 06.50 लाख आवंटन उपलब्ध कराया गया एवं राज्य छात्रवृत्ति हेतु राशि स्कूल शिक्षा विभाग को उपलब्ध कराई गयी। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी नहीं। (ग) बजट प्रावधान अनुसार जिले को राशि उपलब्ध कराई गयी है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी हाँ। माननीय प्रश्नकर्ता सदस्य द्वारा विमुक्त जाति आवास योजना, विमुक्त जाति बस्ती विकास योजना एवं स्वरोजगार योजना हेतु अनुदान के संबंध कुल 8 पत्र जिनका विवरण संलग्न परिशिष्ट पर है, लिखे गये हैं। आवास योजना में बजट प्रावधान सीमित होने के कारण वर्तमान वित्तीय वर्ष 2016-17 में रूपये 36.00 लाख मात्र का आवंटन जिले को उपलब्ध कराया गया। मुख्य मंत्री स्वरोजगार योजना में वर्ष 2016-17 में बजट प्रावधान न होने के कारण जिले को राशि आवंटित नहीं की जा सकी। इसी प्रकार विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जनजाति बस्ती विकास योजना में जिले से अपूर्ण प्रस्ताव प्राप्त होने के कारण राशि स्वीकृत नहीं की जा सकी।
नियमित वेतनमान/वेतनवृद्धि दिया जाना
[स्कूल शिक्षा]
46. ( क्र. 1128 ) डॉ. गोविन्द सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश में अंशकालीन लिपिकों एवं भृत्यों की नियुक्ति ''शिक्षाकर्मी योजना'' के तहत की गई थी? उन्हें वर्तमान में प्रतिमाह कितना-कितना मानदेय प्रदान किया जा रहा है? (ख) क्या शिक्षाकर्मी योजना के तहत नियुक्त शिक्षाकर्मियों (वर्तमान में अध्यापक संवर्ग) को दिए जा रहे वेतन की तुलना में अंशकालीन लिपिकों एवं भृत्यों को अत्यंत न्यूनतम वेतन (मानदेय) प्रदान किया जा रहा हैं? (ग) यदि हाँ, तो क्या उक्त संवर्ग के लिपिकों/भृत्यों को भी उनकी सेवावधि एवं अनुभव को दृष्टिगत रखते हुए शिक्षाकर्मियों की तरह नियमित वेतनमान प्रदान किए जाने की शासन की कोई योजना है? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) क्या आगामी बजट 2017-18 में अशंकालीन लिपिक एवं अंशकालीन भृत्य की वेतनवृद्धि की जावेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। स्कूल शिक्षा विभाग अंतर्गत कार्यरत अंशकालीन लिपिक को रूपये 5000/- तथा अंशकालीन भृत्यों को रूपये 4000/- प्रतिमाह मानदेय दिया जा रहा है। (ख) अंशकालीन लिपिक एवं भृत्यों को शिक्षाकर्मियों (वर्तमान में अध्यापक संवर्ग) से कम मानदेय (वेतन) दिया जा रहा है। (ग) एवं (घ) वर्तमान में ऐसा कोई प्रस्ताव शासन में विचाराधीन नहीं है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
अनुसूचित बस्ती विकास के अंतर्गत स्वीकृत निर्माण कार्य
[अनुसूचित जाति कल्याण]
47. ( क्र. 1260 ) श्री नरेन्द्र सिंह कुशवाह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला संयोजक आदिम जाति कल्याण विभाग भिण्ड द्वारा अप्रैल 11 से प्रश्नांश दिनांक तक कौन से कार्य निर्माण हेतु स्वीकृत किए गए हैं, वहां पर कितनी अनुसूचित जाति के व्यक्तियों का निवास है? (ख) प्रश्नांश (क) के अंतर्गत कौन से निर्माण कार्य अप्रारंभ/प्रारंभ/ पूर्ण/अपूर्ण हैं? प्रश्नांश दिनांक तक क्या स्थिति है, किस स्तर के अधिकारी द्वारा कब निरीक्षण किया गया? (ग) प्रश्नांश (क) के अंतर्गत अपूर्ण कार्यों के लिये कौन उत्तरदायी हैं, इसके लिये क्या कार्यवाही की जायेगी? (घ) प्रश्नांश (क) के अंतर्गत प्रश्नांश दिनांक तक कौन से निर्माण कार्यों का किस प्रयोगशाला में कब निरीक्षण परीक्षण करवाया गया किस स्तर के अधिकारी द्वारा कब निरीक्षण कहाँ पर किया गया? निरीक्षण प्रतिवेदन के विवरण सहित जानकारी दें?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) संबंधित निर्माण एजेंसी उत्तरदायी है। अपूर्ण कार्य को पूर्ण करना एक सतत् कार्य है। (घ) निर्माण कार्यों का प्रयोगशाला में निरीक्षण/परीक्षण नहीं कराया गया है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
आदिम जाति कल्याण विभाग के अंतर्गत के छात्रावासों में दर्ज संख्या
[आदिम जाति कल्याण]
48. ( क्र. 1306 ) श्री हेमन्त विजय खण्डेलवाल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बैतूल जिले में आदिम जाति कल्याण विभाग के अंतर्गत कितने छात्रावास संचालित हैं? विकासखंडवार सूची उपलब्ध करावें? (ख) वर्ष २०१४, २०१५ एवं २०१६ में किस-किस छात्रावास में कितने-कितने विद्यार्थी रहे वर्ष वार संख्या बतावें? (ग) उक्त अवधि में छात्रावासों पर किस-किस कार्य के लिए कितनी कितनी राशि व्यय की गई वर्षवार प्रत्येक छात्रावास की अलग अलग जानकारी दें?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) बैतूल जिले में आदिम जाति कल्याण विभाग के अंतर्गत 76 छात्रावास संचालित हैं। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''क'' अनुसार है। (ख) वर्ष 2014-15 एवं 2015-16 में निवासरत विद्यार्थियों की वर्षवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''क'' अनुसार है। (ग) उक्त अवधि में छात्रावासों में कराये गये कार्य एवं कार्य के विरूद्ध व्यय की गई राशि का वर्षवार प्रत्येक छात्रावास की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ग-1'', ''ग-2'' एवं ''ग-3'' अनुसार है।
शिक्षक संवर्ग को तृतीय समयमान वेतनमान का लाभ
[स्कूल शिक्षा]
49. ( क्र. 1334 ) श्री अरूण भीमावद : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वित्त विभाग के परिपत्र दि. 24.1.08 के अनुसार राज्य की सिविल सेवा के सदस्यों को सेवा में आगे बढ़ने के निश्चित अवसर उपलब्ध कराए जाने की दृष्टि से क्रमोन्नति योजना को संशोधित करते हुए समयमान वेतन उपलब्ध कराए जाने हेतु योजना प्रभावशील की गई? (ख) क्या इसी प्रकार वित्त विभाग के परिपत्र दि. 30 सितम्बर 2014 द्वारा समयमान वेतनमान योजना को विस्तारित करते हुए तृतीय समयमान वेतन उपलब्ध कराने की योजना प्रभावशील की गई? (ग) क्या (क) एवं (ख) के अनुसार उक्त दोनों योजनाएं निश्चित विभागों के निश्चित पदों के लिए ही है? या प्रदेश के समस्त शासकीय कर्मचारियों के लिए है? (घ) क्या तृतीय समयमान वेतन की योजना का लाभ शिक्षक संवर्ग के कर्मचारियों को भी प्राप्त होगा? यदि हाँ, तो कब तक?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (घ) वर्तमान में प्रावधान नहीं है।
रोगी कल्याण समिति की राशि का उपयोग
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
50. ( क्र. 1336 ) श्री अरूण भीमावद : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला चिकित्सालय शाजापुर में रोगी कल्याण समिति क्रियाशील है? (ख) यदि हाँ, तो समिति को किस-किस माध्यमों से राजस्व प्राप्त होता है? क्या समिति आय-व्यय का ब्यौरा विधिवत संधारण करती है? (ग) यदि संधारण करती है तो वर्ष 2014 से 2016 तक कितनी आय एवं व्यय हुआ तथा क्या आय-व्यय का समिति द्वारा अनुमोदन लिया गया है? (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) का मदवार आय-व्यय विवरण/अनुमोदन बतलायें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) रोगी कल्याण समिति को विभिन्न मदों के तहत प्राप्त राजस्व की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। जी हाँ। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। जी हाँ। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। आय-व्यय के अनुमोदन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’ब’’ अनुसार है।
अनुसूचित जाति बाहुल्य ग्रामों में विद्युतीकरण कार्य
[अनुसूचित जाति कल्याण]
51. ( क्र. 1352 ) डॉ. गोविन्द सिंह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भिण्ड जिले को अनुसूचित विभाग द्वारा वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में विकास एवं विद्युतीकरण कार्य हेतु कितनी-कितनी राशि आवंटित की गई? आवंटित राशि किस-किस अधिकारी की स्वीकृति से किस-किस कार्य हेतु कहाँ-कहाँ व्यय की गई वर्षवार विवरण दें? (ख) उपरोक्त अवधि में स्वीकृत की गई राशि के ग्रामों की जनसंख्या का प्रतिशत क्या है? राशि वितरण के नियमों की प्रति दें? (ग) प्रश्नकर्ता के पत्र क्रमांक 174 दिनांक 31.08.2015 एवं पत्र क्रमांक 175 दिनांक 31.08.2015 द्वारा अनुसूचित जाति बस्ती ग्राम पंचायत वैशपुरा के ग्राम छिवावली नं. 1 लालपुरा पंचायत के ग्राम श्यामपुरा में विद्युतीकरण का प्रस्ताव दिया था? यदि हाँ, तो अभी तक विद्युतीकरण न करने का कारण बतावें?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ एवं ‘ब’ अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘स’ एवं ‘द’ अनुसार है। नियम की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ई’ अनुसार है। (ग) जी हाँ। आवंटित राशि समर्पित होने के कारण कार्य स्वीकृत नहीं किया गया।
स्वीकृति से अधिक पदों पर नियुक्ति
[अनुसूचित जाति कल्याण]
52. ( क्र. 1353 ) डॉ. गोविन्द सिंह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या अनुसूचित जाति कल्याण विभाग का पत्र क्रमांक एफ 23-7/2014/25-5 दिनांक 26 सितम्बर 2014 के द्वारा 10 संभागीय आवासीय विद्यालय में नियमित पदों के सृजन की स्वीकृति दी गई थी? (ख) यदि हाँ, तो क्या नियमित पदों के सृजन की स्वीकृति में आरक्षण नियमों का पालन किया गया है एवं इस संबंध में राजपत्र में प्रकाशन किया गया है? यदि नहीं, तो क्यों? कितने प्राचार्य के पद सृजन किये गये थे? (ग) क्या विभागीय आदेश क्रमांक एफ 23-7/2014/25-5 दिनांक 23 अप्रैल 2015 द्वारा 7 प्राचार्यों की नियुक्ति की गई है? (घ) यदि हाँ, तो प्रश्नांश (क) में उल्लेखित स्वीकृत तीन पदों के विरूद्ध सात पदों पर नियुक्ति किस आधार पर की गई? यदि यह नियुक्ति नियमानुसार नहीं है तो क्या इसकी जाँच कराकर संबंधित दोषियों के विरूद्ध कार्यवाही की जायेगी?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) पदों के सृजन में आरक्षण नियमों के पालन की आवश्यकता नहीं है एवं राजपत्र में प्रकाशन आवश्यक नहीं है। कुल 10 प्रथम श्रेणी प्राचार्यों के पद सृजित किये गये हैं। (ग) जी हाँ। (घ) म.प्र. शासन, आदिम जाति एवं अनुसूचित जाति कल्याण विभाग के पत्र क्र. एफ 12/33/2002/25/4, दि. 27.12.2006 द्वारा 7 प्रथम श्रेणी के प्राचार्य के पदों की स्वीकृति पूर्व से प्राप्त है। अत: स्वीकृत पदों के विरूद्ध 07 पदों पर नियुक्ति/पदस्थापना की गयी है। पदस्थापना नियमानुसार होने से कोई दोषी नहीं है। अत: कार्यवाही का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
अतिशेष शिक्षकों की सूची
[आदिम जाति कल्याण]
53. ( क्र. 1370 ) श्री विजय सिंह सोलंकी : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) खरगौन जिले में वर्ष 2011 से 2016 तक समयावधि में जारी अतिशेष शिक्षकों की सूची नाम, पद, स्थान, पदस्थापना सहित सूची देवें। इस सूची में से कितने शिक्षकों को किस स्कूल में स्थानांतरण किया गया? (ख) उक्त अतिशेष सूची में से कितने शिक्षकों का स्थानांतरण नहीं किया गया कारण सहित बताये? (ग) अतिशेष सूची में शिक्षक चयन की नियमावली देवें। चयन उपरांत भी उसी स्कूल में पदस्थ रहने वाले शिक्षकों की सूची नाम, पद, स्कूल स्थान सहित सूची देवे। (घ) खरगौन जिले नगरीय निकाय क्षेत्र अंतर्गत प्राथमिक एवं माध्यमिक विद्यालयों में विगत 5 वर्षों में पदस्थ शिक्षको, प्रधान पाठकों के नाम, पद, पदस्थापना दिनांक, सहित सूची देवें?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' एवं 'ब' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'स' अनुसार है। (ग) नियमावली पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'द' एवं सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'क' अनुसार है। (घ) पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ख' अनुसार है।
जिला स्तर पर कब-कब दवा खरीदी
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
54. ( क्र. 1372 ) श्री विजय सिंह सोलंकी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विगत 5 वर्षों में खरगौन जिला स्तर पर कब-कब दवा खरीदी हेतु निविदा बुलाई गई, किन-किन कंपनियों की निविदा आवेदन प्राप्त हुए तथा किन-किन कंपनियों का चयन किन शर्तों पर किया गया, किन कंपनियों के आवदेन किन कारणों से अस्वीकृत किये गये। (ख) निविदा दिनांक, कंपनी के नाम व पता, चयनित कंपनियों के नाम व पता, अस्वीकृत कंपनियों के नाम व पता सहित सूची देवे। निविदा शर्तों की प्रति देवें। (ख) विगत 5 वर्षों में किन-किन कंपनियों से कब-कब कितनी दवाई क्रय की गई, कंपनी का नाम, भुगतान राशि सहित सूची देवें। क्या निविदा में चयनित कंपनियों से ही समस्त दवाइयां क्रय की गई हैं। यदि नहीं, तो कारण बतायें। (ग) यदि अनिविदाकर्ता कंपनी से दवाई क्रय की गई है तो इसकी आवश्यकता एवं खरीदी अनुमोदन, अनुमति संबंधी नियमावली देवें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र –‘’अ’’ अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र –‘’ब’’ अनुसार है। जी हाँ। प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) अनिविदाकर्ता कंपनी से दवाई क्रय नहीं की गई। वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में स्थानीय स्तर पर किए गए टेंडर से कोई भी औषधी क्रय नहीं की गई है। समस्त औषधियां मध्यप्रदेश पब्लिक हेल्थ सर्विसेस कार्पोरेशन लिमिटेड, मध्यप्रदेश, भोपाल की फर्मों से ऑनलाईन क्रय की गई है।
कन्या आश्रम, छात्रावास में सुरक्षागार्ड की नियुक्ति
[अनुसूचित जाति कल्याण]
55. ( क्र. 1404 ) श्री सत्यपाल सिंह सिकरवार : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मुरैना जिला तहसील के ग्राम नावली के कन्या आश्रम, छात्रावास की दीवाल की ऊँचाई बहुत कम है? (ख) क्या उक्त कन्या आश्रम, छात्रावास की ऊँचाई कम होने से बच्चों में असुरक्षा की भावना बनी रहती है वर्तमान में सुरक्षा की दृष्टि से सुरक्षागार्ड की तैनाती रात्रिकाल में की गई है या नहीं? (ग) क्या अनके बार आवेदन देने के बाद भी विभाग द्वारा सुरक्षा गार्ड की व्यवस्था नहीं की गई है? रात्रिकालीन सुरक्षा हेतु गार्ड की व्यवस्था कब तक कर दी जावेगी?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी नहीं। (ख) जी नहीं। रात्रिकालीन चौकीदार पदस्थ है। (ग) दिन एवं रात्रि में सुरक्षा व्यवस्था हेतु चौकीदारों की नियुक्ति की गई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
वंचित/कमजोर वर्ग के बच्चों को नि:शुल्क प्रवेश
[स्कूल शिक्षा]
56. ( क्र. 1478 ) श्री प्रताप सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शिक्षा का अधिकार अधिनियम की धारा 12 (1) (ग) में दिये गये प्रावधान अनुसार अशासकीय विद्यालयों में वंचित समूह और कमजोर वर्ग के बच्चों को कक्षा एक अथवा प्री स्कूल की प्रथम प्रवेशित कक्षा में न्यूनतम 25 प्रतिशत नि:शुल्क प्रवेश की व्यवस्था है? (ख) यदि हाँ, तो विगत दो वर्षों में जबेरा विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत किन-किन अशासकीय विद्यालयों में कितने-कितने विद्यार्थियों को अनिवार्य शिक्षा के तहत विद्यालय में नि:शुल्क प्रवेश दिया गया है, विद्यालयवार संख्या सहित जानकारी देवे? (ग) क्या वंचित समूह में अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति के साथ-साथ वन ग्राम के पट्टाधारी परिवार, विमुक्त जाति तथा नि:शक्त बच्चे शामिल हैं? क्या कमजोर वर्ग के अंतर्गत गरीबी रेखा के नीचे जीवन-यापन करने वाले परिवार शामिल है? (घ) नि:शुल्क शिक्षा प्रवेश न देने के लिए किन-किन विद्यालयों की शिकायत शिक्षा विभाग एवं कलेक्टर को प्राप्त हुई है, आवेदनों पर क्या कार्यवाही की गई है आवेदनवार जानकारी देवें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। माननीय सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय अनुसार अल्पसंख्यक शिक्षण संस्थाओं को अधिनियम के इस प्रावधान से मुक्त रखा गया है। (ख) जानकरी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी हाँ। (घ) जी नहीं। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्वीकृत राशि के उपरांत नियत समय में पूर्ण कार्य
[स्कूल शिक्षा]
57. ( क्र. 1480 ) श्री प्रताप सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जवेरा विधान सभा क्षेत्र में वर्ष 2014 से प्रश्न दिनांक तक किस विद्यालय में किस कार्य हेतु कितनी-कितनी राशि दी गई? क्या कार्य स्वीकृति के उपरांत निर्माण नियत समय अवधि में पूर्ण हुआ अथवा नहीं? कितने कार्य अपूर्ण है अपूर्ण रहने का क्या कारण है? (ख) जबेरा विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत कितने विद्यालय शौचालय/किचिन शेड/हैंण्डपंप/खेल मैदान एवं भवनविहीन है? कितने विद्यालयों में खेल मैदान अथवा शाला परिसर की भूमि पर अतिक्रमण है ऐसे अतिक्रमण को हटाने के लिए शिक्षा विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई है उनके द्वारा अतिक्रमण हटाने के लिए कलेक्टर एवं राजस्व अधिकारियों से कब-कब पत्राचार किया गया? (ग) जबेरा विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत उल्लेखित अवधि के दौरान कब-कब भवन/अतिरिक्त कक्ष निर्माण की स्वीकृति कितनी-कितनी राशि की किस-किस दिनांक को दी गई है? क्या स्वीकृत कार्य पूर्ण है अथवा अपूर्ण है कार्य अपूर्ण रहने के लिए कौन जिम्मेदार है? क्या अतिरिक्त कक्ष अथवा शाला भवन विहीन होने से छात्र/छात्राओं का अध्यापन कार्य प्रभावित होता है? यदि हाँ, तो इसके लिए कौन जिम्मेदार है? क्या जिम्मेदारों पर जाँच कर कार्यवाही की जावेगी यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) हाई व हायर सेकेण्डरी विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार। प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। 25 अपूर्ण कार्यों में से वर्ष 2014-15 के 01 कार्य जिसके अपूर्ण रहने का कारण राशि वर्ष 2016 में जारी होना है। शेष अपूर्ण 24 शौचालय निर्माण के कार्य वर्ष 2016-17 में 200 से अधिक नामांकन के आधार पर स्वीकृत है, जिनके निर्माण की कार्यवाही प्रचलन में है। (ख) हाई व हायर सेकेण्डरी विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार। शासकीय कन्या उ.मा.वि. जबेरा में अतिक्रमण के संबंध में जि.शि.अ. जिला दमोह के पत्र दि. 17.6.2014, दिनांक 02.06.2015 तथा 08.07.2016 के द्वारा संबंधित राजस्व अधिकारियों से अतिक्रमण मुक्त कराने हेतु पत्राचार किया गया है। प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। दोनों विकासखण्डों में कुल 17 प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं में अतिक्रमण है। कार्यालय कलेक्टर दमोह के पत्र क्रमांक-934, दि. 26.6.2015 एवं जिला शिक्षा केन्द्र दमोह के पत्र क्रमांक-70, दि. 6.1.16 से अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) तेंदूखेड़ा को शालाओं में व्याप्त अतिक्रमण हटाने हेतु लिखा गया है। (ग) हाई व हायर सेकेण्डरी विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार। प्राथमिक/ माध्यमिक शालाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। शेषांश जी नहीं। वर्तमान में विकासखण्ड जबेरा अन्तर्गत 04 माध्यमिक शालाएं एवं 01 प्राथमिक शाला भवन विहीन है। माध्यमिक शालाओं का संचालन ग्राम की प्राथमिक शाला में किया जा रहा है एवं 01 प्राथमिक शाला का संचालन ग्राम में उपलब्ध शासकीय भवन (सामुदायिक भवन) में किया जा रहा है। वर्तमान में उक्त शालाओं में अध्ययन कार्य प्रभावित नहीं हो रहा है, अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के भवन का निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
58. ( क्र. 1486 ) श्री सुदर्शन गुप्ता (आर्य) : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शिक्षा विभाग अन्तर्गत इन्दौर जिले का जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय जर्जर अवस्था में है? (ख) यदि हाँ, तो क्या शासन द्वारा इसे बनाए जाने की कोई योजना है? (ग) यदि हाँ, तो कब तक भवन निर्माण हेतु कार्यवाही पूर्ण कर भवन तैयार कर लिया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) विभागीय आदेश क्रमांक एफ 27-10/ 2016/20-2, दिनांक 09.11.2016 के द्वारा कार्यालय भवन हेतु प्रशासकीय एवं वित्तीय स्वीकृति प्रदान की गई है। (ग) भवन के निर्माण हेतु भूमि के चिन्हांकन के पश्चात् परियोजना क्रियान्वयन इकाई लोक निर्माण विभाग द्वारा निर्माण की कार्यवाही की जायेगी। निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
स्कूल भवनों की बाउण्ड्रीवॉल निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
59. ( क्र. 1565 ) डॉ. कैलाश जाटव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा क्षेत्र गोटेगांव अंतर्गत अधिकांश हाईस्कूल, हायसेकण्डरी स्कूल एवं माध्यमिक शाला बाउण्ड्रीवॉल विहीन हैं। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार यदि हाँ, तो हाईस्कूल, हायरसेकण्डरी स्कूल एवं माध्यमिक शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल निर्माण किये जाने की शासन की कोई मंशा है? यदि हाँ, तो अवगत करावें। (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार विधानसभा क्षेत्र स्थित हाईस्कूल, हायर सेकण्डरी स्कूल एवं माध्यमिक स्कूलों में कब तक बाउण्ड्रीवॉल निर्माण करा दिया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) विधानसभा क्षेत्र गोटेगांव में 119 शासकीय माध्यमिक शालाएं, 19 हाई स्कूल तथा 11 हायर सेकेण्डरी स्कूल बाउण्ड्रीवॉल विहिन है। (ख) जी हाँ। माध्यमिक शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल निर्माण के लिये भारत शासन से स्वीकृति हेतु वार्षिक कार्ययोजना वर्ष 2016-17 में प्रस्तावित किया गया था, पुनः 2017-18 में प्रस्तावित किया गया है। हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों के भवनों के बाउण्ड्रीवॉल निर्माण की स्वीकृति बजट की उपलब्धता पर निर्भर करती है। (ग) भारत शासन से वार्षिक कार्ययोजना वर्ष 2017-18 में स्वीकृति प्राप्त होने पर माध्यमिक शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल का निर्माण किया जा सकेगा तथा हाई एवं हायर सेकेण्डरी विद्यालयों हेतु बाउण्ड्रीवॉल निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
हायरसेकण्डरी स्कूलों के भवन निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
60. ( क्र. 1566 ) डॉ. कैलाश जाटव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा क्षेत्र गोटेगांव अंतर्गत 3 वर्ष पूर्व में हाईस्कूल से हायर सेकण्डरी स्कूल में उन्नयन किये गये विद्यालयों में भवन नहीं हैं? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार जिन हायर सेकण्डरी स्कूलों में भवन नहीं हैं क्या उन भवन विहीन हायर सेकण्डरी स्कूलों में भवन निर्माण किये जाने की शासन की कोई मंशा है? यदि हाँ, तो कब तक इन स्कूलों में भवन निर्माण किया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) शाला भवनों के निर्माण की स्वीकृति बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
उप स्वास्थ्य केन्द्र की स्वीकृति एवं भवनों की स्थिति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
61. ( क्र. 1585 ) श्री दिलीप सिंह शेखावत : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र नागदा-खाचरौद में कितने नवीन उप स्वास्थ्य केन्द्र प्रस्तावित हैं? इनकी स्वीकृति सम्बंधी कार्यवाही किस स्तर पर प्रचलित है? (ख) पहले से संचालित प्रा. उप स्वास्थ्य केन्द्र के कितने केन्द्र भवनविहिन हैं तथा इन प्राथमिक उप स्वास्थ्य केन्द्रों के भवन कब तक स्वीकृत कर दिए जावेंगे?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) कोई नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) खाचरौद के अंतर्गत 29 उप स्वास्थ्य केन्द्र भवन विहिन है। वर्तमान में सीमित वित्तीय संसाधनों के कारण भवन विहिन उप स्वास्थ्य केन्द्रों के निर्माण की समय-सीमा बताना संभव नहीं है।
शासकीय विद्यालयों में शौचालय निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
62. ( क्र. 1586 ) श्री दिलीप सिंह शेखावत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र नागदा-खाचरोद के प्राथमिक से माध्यमिक, माध्यमिक से हाई स्कूल एवं हाई स्कूल से हायर सेकेण्डरी स्कूलों में उन्नयन हेतु कितने स्कूल प्रस्तावित हैं? (ख) इन स्कूलों के उन्नयन की प्रक्रिया किस स्तर पर प्रचलित है? (ग) इनका उन्नयन कब तक हो जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) विधानसभा क्षेत्र नागदा-खाचरोद में प्राथमिक से माध्यमिक शाला उन्नयन का कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है। माध्यमिक से हाईस्कूल एवं हाईस्कूल से हायर सेकेण्डरी स्कूल के उन्नयन हेतु प्रस्ताव परीक्षणाधीन है। (ख) हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों में उन्नयन हेतु मापदण्डों के अनुसार परीक्षण किया जा रहा है। (ग) उन्नयन मापदण्डों की पूर्ति एवं बजट की उपलब्धता पर निर्भर है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
अस्थाई कर्मचारियों को मानदेय भुगतान
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
63. ( क्र. 1612 ) श्री मुरलीधर पाटीदार : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों में रोगी कल्याण समिति के माध्यम से अथवा आउटसोर्सिंग से कर्मचारियो को कार्य पर रखे जाने हेतु क्या दिशा निर्देश एवं प्रक्रिया तय हैं? इसके अलावा कार्य पर रखे जाने वाले कर्मचारियों को मानदेय भुगतान हेतु क्या दिशा निर्देश एवं प्रक्रिया तय हैं? (ख) विधानसभा क्षेत्र सुसनेर अंतर्गत वर्तमान में रोगी कल्याण समिति के माध्यम से अथवा आउटसोर्सिंग से कार्य कर रहे कर्मचारियों की पूर्ण जानकारी जिसमें समस्त जानकारी उल्लेखित हो, विकासखण्डवार उपलब्ध करावें? (ग) प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित कर्मचारियों को मानदेय भुगतान की क्या स्थिति हैं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। आउटसोर्स एजेन्सी के माध्यम से रखे जाने वाले कर्मचारियों को मानदेय भुगतान हेतु दिशा-निर्देश एवं प्रक्रिया निर्धारित है। (ख) एवं (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
आयुर्वेदिक औषधालय की स्वीकृति
[आयुष]
64. ( क्र. 1613 ) श्री मुरलीधर पाटीदार : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विगत 03 वर्षों में मध्यप्रदेश में कितने नवीन आयुर्वेदिक औषधालय/ चिकित्सालय प्रारम्भ किये गये हैं? (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित आयुर्वेदिक औषधालय/ चिकित्सालय में पदपूर्ति की एवं भवन उपलब्धता की क्या स्थिति हैं जिलेवार विवरण देवें। (ग) प्रश्नकर्ता द्वारा विधानसभा क्षेत्र सुसनेर अंतर्गत नवीन आयुर्वेदिक औषधालय/चिकित्सालय प्रारम्भ करने संबंधी या संचालित औषधालय/चिकित्सालयों के भवन निर्माण हेतु कोई मांग की थी या विभाग ने प्रस्ताव भेजे थे? यदि हाँ, तो क्या कार्यवाही की गई? (घ) प्रश्नांश (ग) का उत्तर यदि नहीं, हैं तो क्या स्वप्रेरणा से विधानसभा क्षेत्र सुसनेर में स्वास्थ्य सेवाओं के विस्तार हेतु योजना बनाई जाकर मापदण्ड अनुसार आयुर्वेदिक औषधालय/चिकित्सालय प्रारम्भ किये जावेंगे? यदि हाँ, तो विवरण देवें?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) कोई नहीं। (ख) प्रश्नांश ‘‘क’’ के संदर्भ में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं। (घ) वर्तमान में आयुर्वेदिक औषधालय/ चिकित्सालय खोले जाने की कोई योजना नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अध्यापकों की वरिष्ठता सूची
[स्कूल शिक्षा]
65. ( क्र. 1645 ) श्री नीलेश अवस्थी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जबलपुर जिले द्वारा तैयार अध्यापक वर्ग-1, 2 एवं 3 की वरिष्ठता सूची में कितने एवं कौन-कौन से अध्यापक ऐसे हैं, जिनका स्थानांतरण/संविलियन अन्य जिलों से जबलपुर जिले में किया गया है? (ख) उक्त अन्य जिलों से संविलियन हो कर आये अध्यापकों की सूची नाम, पद नियुक्ति दिनांक, जबलपुर जिले में संविलियन दिनांक वरिष्ठता क्रम सहित दें। (ग) क्या उक्त अध्यापकों की वरिष्ठता नियुक्ति दिनांक से नहीं ली गयी है? यदि हाँ, तो किस नियम के तहत पूर्ण विवरण दें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो आदेश की कण्डिका 17 अनुसार वरिष्ठता निर्धारित की है।
राष्ट्रीय खेल कूद प्रतियोगिताओं का आयोजन
[स्कूल शिक्षा]
66. ( क्र. 1646 ) श्री नीलेश अवस्थी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जबलपुर जिले में वर्ष 2016 में आयोजित राष्ट्रीय खेल कूद प्रतियोगिता में कितनी टीमों के कितने खिलाडि़यों एवं प्रशिक्षकों ने भाग लिया? प्रतियोगिता कितने दिनों चली? (ख) उपरोक्त खेलकूद प्रतियोगिता में जबलपुर स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा खिलाडि़यों के आवास, भोजन, खेलकूद प्रतियोगिताओं हेतु क्या-क्या प्रबंध किन-किन प्रदायकर्ताओं/फर्मों से कितनी-कितनी राशि से किये गये? (ग) वर्ष 2016 में आयोजित खेलकूद प्रतियोगिताओं हेतु जिले में किये गये व्यय की कार्यवार, मदवार, दर सहित पूर्ण विवरण दें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जबलपुर जिले में वर्ष 2016 में आयोजित राष्ट्रीय खेलकूद प्रतियोगिता में 17 राज्यों की टीमों के 353 खिलाडि़यों एवं 38 प्रशिक्षकों ने भाग लिया। प्रतियोगिता दिनांक 07 से 11 नवम्बर 2016 तक कुल पाँच दिनों तक चली। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-क अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ख अनुसार है।
सतना में स्वीकृत पदों से अधिक शिक्षक पदस्थ होना
[स्कूल शिक्षा]
67. ( क्र. 1674 ) श्री शंकर लाल तिवारी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा अता. प्रश्न संख्या 178 (क्रमांक 2720), दिनांक 18/12/2015 के तारतम्य में म.प्र. शासन स्कूल शिक्षा विभाग मंत्रालय भोपाल के पत्र क्रमांक एफ-1-42/14/20-1 भोपाल दिनांक 26/09/2016 द्वारा अतिशेष शिक्षकों के युक्तियुक्तकरण करने के निर्देश जारी किये गये थे? क्या इसके लिए शासन द्वारा पत्र के साथ कैलेण्डर भी जारी किया गया था? (ख) जिला शिक्षा अधिकारी सतना द्वारा प्रश्नांश 'क' में वर्णित निर्देश एवं कैलेण्डर अनुसार प्रश्नांश 'क' के प्रश्न में दी गई सूची के कितने शिक्षकों का युक्तियुक्तकरण किया गया है? यदि नहीं, किया गया तो क्यों? (ग) यदि प्रश्नांश 'क' एवं 'ख' सही है तो शासन के निर्देश का पालन न करते हुए जिले के 1400 अतिशेष शिक्षकों को बनाये रखने वाले इस जिला शिक्षा अधिकारी पर शासन क्या कार्यवाही करेगा बताये? इस अधिकारी की कार्य क्षमता के संबंध में कलेक्टर सतना से अभिमत प्राप्त कर सतना से कब तक हटा दिया जायेगा।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी नहीं। अपितु म.प्र.शासन, स्कूल शिक्षा विभाग के पत्र क्रमांक एफ 01/42/14/20-1 दिनांक 14/09/2016 द्वारा अतिशेष शिक्षकों के युक्तियुक्तकरण करने के निर्देश समस्त जिलों को जारी किये गये है। जी हाँ। (ख) अतिशेष शिक्षकों के युक्तियुक्तकरण की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। (ग) प्रकरण की जाँच कराई जाकर गुण दोष के आधार पर कार्यवाही की जाएगी।
चिकित्सालयों में एम्बुलेंस सुविधा
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
68. ( क्र. 1707 ) श्री राजेन्द्र फूलचंद वर्मा : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र के कितने चिकित्सालयों में आज दिनांक तक कितनी एम्बुलेंस सेवाएं उपलब्ध हैं तथा कहाँ-कहाँ पर नहीं है? (ख) क्या उपलब्ध एम्बुलेंस वाहन सही स्थिति में होकर सभी जगह सुचारू रूप से अपनी सेवाएं दे रहे हैं या नहीं? (ग) क्या सोनकच्छ विधानसभा के नगर पिपलरांवा टोंकखुर्द भौरासा व सोनकच्छ में एम्बुलेंस सेवाएं उपलब्ध कराने की कोई योजना है? यदि, नहीं तो क्यों नहीं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत 02 सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र एवं 03 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र संचालित है। जिनमें आज दिनांक तक कुल 07 (सात) एम्बुलेंस की सेवायें उपलब्ध है, जिनकी जानकारी निम्नानुसार है-
1. |
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र सोनकच्छ- |
01 रोटरी क्लब द्वारा प्रदत्त एम्बुलेंस, 01 108 एम्बुलेंस, 01 जननी एम्बुलेंस |
2. |
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र टोंकखुर्द- |
01 108 एम्बुलेंस, 01 जननी एम्बुलेंस |
3. |
प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र भौरासा - |
01 जननी एम्बुलेंस |
4. |
प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र पीपलरावा - |
01 जननी एम्बुलेंस |
5. |
प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र चैबाराधीरा - |
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र टोंकखुर्द में स्थित एम्बुलेंसों द्वारा यहां सेवायें उपलब्ध करायी जा रही है। |
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|
कुल संख्या - 07 |
(ख) जी हाँ। सभी उपलब्ध एम्बुलेंस सही स्थिति में सभी जगह सुचारू रूप से अपनी सेवायें दे रही है। (ग) सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र में जनसंख्या के आधार पर पर्याप्त मात्रा में एम्बुलेंस उपलब्ध है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र खरगापुर में भवन निर्माण
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
69. ( क्र. 1738 ) श्रीमती चन्दा सुरेन्द्र सिंह गौर : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या खरगापुर सामुदायिक स्वास्थ्य का भवन बनाये जाने हेतु शासन द्वारा राशि स्वीकृत की गई थी परन्तु उक्त राशि जतारा अस्पताल के निर्माण हेतु दे दी गई। वर्ष 2013 से प्रश्न दिनांक तक टीकमगढ़ जिले में कौन-कौन से अस्पतालों के निर्माण हेतु राशि जारी की गई? जानकारी उपलब्ध करायें? यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों? (ख) क्या खरगापुर का अस्पताल काफी पुराने समय का बना हुआ है और उक्त भवन में ज्यादा जगह भी नहीं है तथा मरीजों को आवश्यक सुविधा भी नहीं मिलती है। क्या उक्त भवन को नया बनायेंगे यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों? (ग) खरगापुर, बल्देवगढ़, पलेरा के अस्पतालों का निरीक्षण करने जिले के प्रभारी मंत्री कब-कब गये? यदि नहीं, तो क्या अब निरीक्षण करेंगे। साथ ही खरगापुर में नये भवन बनाये जाने के आदेश जारी करेंगे? यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र खरगापुर के भवन निर्माण हेतु परिसर में भूमि उपलब्ध नहीं होने के कारण सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, जतारा के भवन निर्माण हेतु स्वीकृति परिवर्तित की गई है। शेष प्रश्नांश की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ। जी हाँ। जी नहीं। वर्तमान में नये भवन निर्माण हेतु कोई स्वीकृति प्राप्त नहीं है अतः नये भवन निर्माण की समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। भूमि अनुपलब्धता के कारण भवन निर्माण हेतु वर्तमान में कार्यवाही संभव नहीं है। (ग) जी नहीं, प्रभारी मंत्री द्वारा प्रश्नाधीन अस्पतालों का निरीक्षण तिथि की कोई जानकारी विभाग में प्राप्त नहीं है तथा आगे की निरीक्षण तिथि बताया जाना संभव नहीं है। खरगापुर में नये भवन निर्माण हेतु भूमि उपलब्धता न होने से नये भवन बनाने की समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। अतः शेष का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
अतिथि शिक्षकों के संबंध में
[स्कूल शिक्षा]
70. ( क्र. 1739 ) श्रीमती चन्दा सुरेन्द्र सिंह गौर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या पूरे मध्यप्रदेश सहित टीकमगढ़ जिले की खरगापुर विधान सभा क्षेत्र में शिक्षकों की कमी है। साथ ही अतिथि शिक्षक और शिक्षिकाओं के भरोसे पर अधिकांश स्कूल चल रहे है। प्रदेश में शिक्षकों की कमी का कारण बतायें। (ख) क्या संस्थाओं पर अतिथि शिक्षक समय से पहुंचते है और अच्छा शिक्षण कार्य भी करते है। फिर भी एक शिक्षण सत्र समाप्त हो जाने के बाद उन्हें दुबारा रखे जाने हेतु कई प्रकार के नियमों से गुजरना पड़ता है और कुछ लोगों को पदों से हटना भी पड़ता है। क्या शासन के द्वारा ऐसी कोई योजना नहीं बनाई जा सकती है कि जो अतिथि शिक्षक डी.एड., बी.एड., हो उन्हें हर सत्र में रखे जाने का प्रावधान हो जाये। या इनकी कोई लिखित परीक्षा हो जाये। शासन की अतिथि शिक्षकों की आगामी भर्ती की क्या योजना है? जानकारी से अवगत करायें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी नहीं। तथापि पद स्वीकृति के मान से कार्यरत शिक्षकों की कमी है। शालाओं में स्वीकृत पद मान से रिक्तियाँ होने पर अतिथि शिक्षक की व्यवस्था है, शिक्षकों के सेवानिवृत्ति, सेवा छोड़ने, पुराने पदों का बैकलॉग, संविदा शिक्षकों की चयन परीक्षा नहीं होने इत्यादि से शिक्षकों की कमी है। (ख) विद्यालय में स्वीकृत नियमित पद, कारण विशेष से रिक्त होने पर तात्कालिक शिक्षण व्यवस्था के लिये अतिथि शिक्षक की व्यवस्था है। इसके लिये चयन प्रक्रिया नियत है। संविदा शिक्षक भर्ती हेतु पी.ई.बी. से परीक्षा में चयनित होने पर नियुक्ति हेतु अतिथि शिक्षकों को सेवा अवधि के मान से अंकों का अधिभार देने का प्रावधान किया गया है।
विभागीय प्रशिक्षित व्यायाम शिक्षकों की नियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
71. ( क्र. 1852 ) श्री कुँवरजी कोठार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वर्ष 2010 से जून 2016 तक शासकीय तात्या टोपे राज्य शारीरिक शिक्षा महाविद्यालय शिवपुरी से कितने विभागीय शिक्षकों ने डी.पी.एड. द्विवर्षीय पाठ्यक्रम का प्रशिक्षण प्राप्त किया है और इन शिक्षकों में से कितने शिक्षकों को व्यायाम शिक्षकों के पद पर नियुक्ति प्रदान की गई है? यदि नहीं, की गई तो क्यों नहीं? (ख) क्या प्रशिक्षित शिक्षकों को व्यायाम शिक्षक के पद पर नियुक्ति देने का कोई प्रावधान नहीं है? यदि नहीं, है तो फिर व्यायाम शिक्षक का प्रशिक्षण क्यों दिया जा रहा है? (ग) प्रदेश में व्यायाम शिक्षक के कितने पद स्वीकृत हैं? स्वीकृत पदों में से कितने पदों पर व्यायाम शिक्षक पदस्थ हैं और कितने पद रिक्त हैं? रिक्त पदों पर विभागीय तौर से जो शिक्षक प्रशिक्षण प्राप्त हैं, उनकी नियुक्ति के लिए शासन की क्या योजना है? प्रशिक्षित शिक्षकों को व्यायाम शिक्षकों के पद पर कब तक नियुक्ति प्रदान की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) 04 सहायक शिक्षकों एवं 111 सहायक अध्यापकों इस प्रकार कुल 115 शिक्षकों ने प्रशिक्षण प्राप्त किया। प्रशिक्षण प्राप्त शिक्षक एवं सहायक अध्यापकों को व्यायाम शिक्षक के पद पर नियुक्ति नहीं दी गई। सहायक शिक्षक एवं सहायक अध्यापक से व्यायाम शिक्षक के पद पर नियुक्ति का प्रावधान नहीं है। रिक्त पदों की पूर्ति संविदा भर्ती प्रक्रिया एवं पदोन्नति के माध्यम से किए जाने का प्रावधान है। (ख) जी हाँ। खेलों की गुणवत्ता एवं शिक्षकों की क्षमता बढ़ाने के लिए सहायक शिक्षकों एवं सहायक अध्यापकों को स्वेच्छा से आवेदन करने एवं चयनित होने पर प्रशिक्षण दिया जाता है। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। सीधी भर्ती अंतर्गत संविदा शाला शिक्षक श्रेणी-3 व्यायाम शिक्षक के पदों पर नियुक्ति के संबंध में कार्यवाही प्रचलन में है। रिक्त पदों पर विभागीय तौर से शिक्षक प्रशिक्षण प्राप्त है, उनकी नियुक्ति की शासन की कोई योजना नहीं है अपितु प्रशिक्षित सहायक शिक्षकों को व्यायाम शिक्षक के 75% पदों पर पदोन्नति का प्रावधान है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नगर पंचायत सेवढ़ा में इंटर कॉलेज खोला जाना
[स्कूल शिक्षा]
72. ( क्र. 1855 ) श्री प्रदीप अग्रवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दतिया जिले की सेवढ़ा विधानसभा क्षेत्र की नगर पंचायत सेवढ़ा में कन्या उच्चतर माध्य विद्यालय (इन्टर कॉलेज) खोने जोन बाबत् शिक्षा विभाग से कोई स्वीकृति प्रदान की गई है? यदि हाँ, तो कब, स्वीकृति संबंधी दस्तावेज उपलब्ध करायें? (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित नगर पंचायत सेवढ़ा में विभाग द्वारा स्वीकृति उपरान्त कन्या इंटर कॉलेज शुरू हुआ अथवा नहीं? यदि नहीं, तो क्यों? इसके लिये कौन-कौन जिम्मेदार हैं, उनके खिलाफ क्या कार्यवाही की गई? (ग) क्या शासन से स्वीकृति उपरांत भी जिलास्तर से उक्त कार्य को करने हेतु कोई कार्यवाही नहीं की गई? यदि नहीं, तो कार्यवाही विवरण की छायाप्रतियां उपलब्ध कराई जाये? (घ) उक्त विद्यालय कब तक शुरू किया जायेगा, ताकि बालिकाएं स्वतंत्र रूप से अध्ययन कर सकेंगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जिल योजना समिति के अनुमोदन से दिनांक 14/12/2000 को स्वीकृति जिल शिक्षा अधिकारी द्वारा जारी की गई है। संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ख) आदेश के संदर्भ में स्कूल संचालित है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) एवं (घ) उत्तरांश ''ख'' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
राष्ट्रपति पुरूस्कार से सम्मानित शिक्षक
[स्कूल शिक्षा]
73. ( क्र. 1858 ) श्री प्रदीप अग्रवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश में वर्ष 2010 के उपरांत प्रश्न दिनांक तक किन-किन शिक्षकों को राष्ट्रपति पुरूस्कार से सम्मानित किया गया वर्षवार/जिलावार/नाम एवं पद सहित जानकारी उपलब्ध कराई जावे। (ख) राष्ट्रपति पुरूस्कार से सम्मानित किये जाने के संबंध में शासन के क्या नियम एवं निर्देश हैं? छायाप्रति उपलब्ध करावें? क्या पुरूस्कृत होने वाले शिक्षकों की सूची जिला स्तर से तैयार की जाती है? यदि हाँ, तो किस आधार पर। (ग) कंडिका (क) में वर्णित वे अधिकारी कर्मचारी जिन्हें पुरूस्कृत किया गया, उनके द्वारा ऐसे क्या-क्या उत्कृष्ट कार्य किये गये, परिणाम स्वरूप उन्हें सम्मानित किया गया? (घ) क्या पुरस्कार के लिये जिले से सूची तैयार कर संभाग और संभाग से राजधानी भेजी जाती है, संभाग एवं राजधानी स्तर पर जिला से भेजी सूची में फेरबदल किया जाता है? यदि नहीं, तो इसकी जाँच कराई जावेगी तथा इसके लिये कौन-कौन दोषी है? उनके खिलाफ क्या कार्यवाही की जायेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। (ख) नियम एवं निर्देश पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- दो अनुसार है। संलग्न निर्देशों में जिला स्तरीय चयन एवं अनुशंसा समिति की व्यवस्था है। इस समिति द्वारा प्राप्त प्रकरणों के मूल्यांकन उपरान्त गुणानुक्रम में सूची तैयार की जाती है। इस गुणानुक्रम सूची से श्रेणीवार प्रथम दो नाम राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार हेतु राज्य स्तरीय चयन समिति को प्रेषित किए जात है। (ग) पुरस्कृत शिक्षकों में से व्याख्याता, शिक्षक, सहायक शिक्षक, अध्यापक को न्यूनतम 15 वर्ष एवं प्राचार्य, प्रधानाध्यापक को 20 वर्ष के न्यूनतम सेवाकाल की अनिवार्यता एवं पूरे सेवाकाल में विभागीय लक्ष्यों/उद्देश्यों को प्राप्त करने हेतु विधार्थी नामांकन, उत्कृष्ट परीक्षा परिणाम, नवाचार, शिक्षण को रूचिकर बनाने हेतु प्रयुक्त विधियों, प्रशिक्षण, लेखन कौशल तथा विभिन्न स्तर पर प्राप्त पुरस्कार आदि के आधार पर ‘‘राज्य स्तरीय चयन समिति‘‘ द्वारा किये गये मूल्यांकन व अनुशंसा के आधार पर भारत सरकार द्वारा शिक्षकों को पुरस्कृत/सम्मानित किया जाता है। (घ) संभाग स्तर पर समिति गठित नहीं है। जिला स्तरीय चयन/अनुशंसा समिति से प्राप्त प्रकरणों का राज्य स्तरीय चयन समिति द्वारा उपलब्ध अभिलेख के आधार पर मूल्यांकन किया जाकर गुणानुक्रम सूची तैयार कर राष्ट्रीय शिक्षक पुरूस्कार हेतु भारत सरकार को अनुशंसा भेजने का प्रावधान है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत अतिरिक्त कक्ष निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
74. ( क्र. 1873 ) श्री महेन्द्र सिंह कालूखेड़ा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत वर्ष 2013-14, 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में अशोकनगर एवं रतलाम जिले के किस-किस विकासखण्ड में किस-किस ग्राम में भवन, बाउण्ड्रीवाल, शौचालय एवं अतिरिक्त कक्ष स्वीकृत होकर राशि प्राप्त हो चुकी है व कितनों को राशि मिलना शेष है व कब तक प्रदाय कर दी जावेगी? (ख) जावरा एवं मुंगावली विधानसभा क्षेत्र के कुल कितने भवन कहाँ-कहाँ स्वीकृत हुए, कितने पूर्ण हैं व कितने अपूर्ण व अप्रारम्भ व कितने भवनों की यू.सी. जारी की गई कितनों की नहीं? इसके लिये कौन अधिकारी दोषी है? ग्रामवार विवरण दें। (ग) क्या निमार्ण एजेन्सी द्वारा भवन राशि का दुरूपयोग किया गया? यदि हाँ, तो किन-किन एजेन्सियों द्वारा? नाम, पते सहित विवरण देते हुए बताए कि उनके विरूद्ध विभाग द्वारा क्या-क्या कार्यवाही कब-कब की गई?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) सर्व शिक्षा अभियान के अन्तर्गत वर्ष 2013-14, 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में अशोकनगर एवं रतलाम जिले में स्वीकृत भवन एवं शौचालय की विकासखण्डवार एवं ग्रामवार राशि का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' एवं 'ब' अनुसार है। उक्त अवधि में वार्षिक कार्ययोजना अनुसार बाउण्ड्रीवॉल एवं अतिरिक्त कक्ष की स्वीकृति भारत सरकार से प्राप्त नहीं हुई है। (ख) उक्त अवधि में मुंगावली विधानसभा क्षेत्र में कोई भी भवन स्वीकृत नहीं है। जावरा विधानसभा क्षेत्र अन्तर्गत 05 भवनों के कार्य स्वीकृत होकर निर्माणाधीन है। निर्माणाधीन होने से भवनों की यू.सी. जारी नहीं की गयी है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'स' अनुसार है। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है। (ग) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है।
गुणवत्ताहीन शाला भवन निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
75. ( क्र. 1874 ) श्री महेन्द्र सिंह कालूखेड़ा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या अशोकनगर जिले के विधानसभा क्षेत्र मुंगावली ग्राम झागरबमुरिया में माध्यमिक शाला के लिये 2007-08 में 607800 रू. स्वीकृत हुए व आहरण हुआ व मूल्यांकन 450733 का हुआ फिर भी भवन निर्माण कार्य गुणवत्ताहीन हुआ है? क्या इसकी शिकायत उपसरपंच ने की है तथा 2 लाख की वसूली की कार्यवाही चल रही है? (ख) क्या गलत मूल्यांकन एवं स्तरहीन निर्माण की शिकायत, पूरी धनराशि वसूल करने तथा दोषी इंजीनियर व सरपंच सचिव पर सख्त कार्यवाही की मांग उपसरपंच ने दिसंबर 2016 में जिलाधीश से की है? यदि हाँ, तो उस पर क्या कार्यवाही हो रही है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) अशोकनगर जिले के विधानसभा क्षेत्र मुंगावली के ग्राम झागरबमुरिया में माध्यमिक शाला भवन के निर्माण के लिये वर्ष 2007-08 में कोई स्वीकृति नहीं दी गई है। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है (ख) उक्त कार्य स्वीकृत ही नहीं होने से उत्तरांश के अनुसार प्रश्न की उपस्थित नहीं होता है। परंतु ग्राम बमोरीखुटिया में स्वीकृत कार्य के संबंध में उप सरपंच द्वारा शिकायत की गई थी, जिसमे निर्माण एजेंसी के सचिव के विरूद्ध पंचायती राज अधिनियम की धारा 92 के तहत अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) के न्यायालय में प्रकरण क्र 16 ब 121/16-17 पंजीबद्ध है जिसके अन्तर्गत राशि रू 178000 की वसूली की कार्यवाही प्रचलित है।
अनुकम्पा नियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
76. ( क्र. 1880 ) श्री यशपालसिंह सिसौदिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) 1 जनवरी 2013 के पश्चात् उज्जैन संभाग में अनुकम्पा नियुक्ति हेतु किस-किस जिले में, कितने आवेदन प्राप्त हुए? इनमें कितने को नियुक्ति दे दी गयी? (ख) इनमें ऐसे कितने व्यक्ति हैं जिन्हें प्रश्न दिनांक तक अनुकम्पा नियुक्ति नहीं दी गई? अनुकम्पा नियुक्ति नहीं देने के क्या कारण रहे? (ग) क्या अध्यापक सवर्ग में अनुकम्पा नियुक्ति हेतु बी.एड., बी.टी.आई. आवश्यक है? क्या अध्यापक संवर्ग में उक्त दिनांक के बाद कर्मचारी की मृत्यु के उपरान्त समस्त मृत कर्मचारियों के nsdl की राशि का भुगतान परिवार वालों को कर दिया? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) क्या शा. प्राथमिक कन्या विद्यालय नाहरगढ़ जिला मंदसौर में पदस्थ सहायक अध्यापक की 3 अप्रैल 2004 को मृत्यु उपरान्त उनकी पुत्री ने दिनांक 5/7/2013 को तथा पूर्व में भी विभाग को आवेदन किया था? यदि हाँ, तो अनुकम्पा नियुक्ति प्रश्न दिनांक तक नहीं देने के क्या कारण रहे तथा शिक्षिका की पुत्री को इस हेतु कब कब अवगत कराया गया? सामान्य प्रशासन विभाग की कंडिका-2 दिनाक 1 अक्टूम्बर 2002 से अवगत कराये?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) उज्जैन संभागान्तर्गत 01 जनवरी, 2013 के पश्चात् 300 प्रकरण अनुकम्पा नियुक्ति हेतु प्राप्त हुए है। जिसमें से 177 प्रकरणों में अनुकम्पा नियुक्ति प्रदान की गई है। (ख) उज्जैन संभागान्तर्गत अनुकम्पा नियुक्ति के कुल 123 प्रकरण लंबित है। इन प्रकरणों में संविदा शाला शिक्षक के पद पर अनुकम्पा नियुक्ति हेतु आवेदक की निर्धारित शैक्षणिक योग्यता, प्रशिक्षण (बी.एड./डी.एड.) के साथ शिक्षक पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण नहीं होने से तथा सहायक ग्रेड-3 के पद रिक्त नहीं होने के कारण अनुकम्पा नियुक्ति नहीं दी जा सकी है। (ग) जी हाँ। उज्जैन संभागान्तर्गत कुल 71 प्रकरणों में से 20 प्रकरणों में भुगतान किया जा चुका है, 32 प्रकरण भुगतान की कार्यवाही हेतु एन.एस.डी.एल. को ऑनलाईन प्रविष्टि की गई है, तथा 19 प्रकरणों में कार्यवाही जिला स्तर पर प्रचलन में है। (घ) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
संविदा भृत्यों का मानदेय निर्धारण
[स्कूल शिक्षा]
77. ( क्र. 1881 ) श्री यशपालसिंह सिसौदिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के अतारांकित प्रश्न संख्या-147 (क्रमांक 1940) दिनांक 9 दिसम्बर के प्रश्नांश (घ) के उत्तर में बताया गया की मंदसौर जिले में भारत सरकार द्वारा संचालित बाल श्रम परियोजना अन्तर्गत विद्यालयों के सेवा मुक्त स्टाफ के भृत्यों को संविदा शाला भर्ती नियम, 2005 के प्रावधान अनुसार स्कूल शिक्षा विभाग के अन्तर्गत संविदा भृत्यों के पद पर नियुक्ति दी जाने की कार्यवाही प्रचलन में है? कार्यवाही की वर्तमान स्थिति क्या है? श्रम विभाग के इन भृत्यों को कब तक स्कूल शिक्षा विभाग में नियुक्ति दे दी जायेगी? (ख) क्या लोक शिक्षण कार्यालय को प्रश्नांश (क) से संदर्भित भृत्यों ने 19 नवम्बर 2016 को सूचना के अधिकार के तहत जानकारी चाही गई थी? यदि हाँ, तो दी गई जानकारी की प्रतिलिपि उपलब्ध करायें? (ग) मंदसौर जिले के विभिन्न विद्यालयों में भृत्य के कितने पद रिक्त हैं, कितने कार्यरत हैं? क्या शासन द्वारा भृत्य के लिए अलग से राशि एवं निर्देश प्रदान करने के बावजूद भी कई शासकीय विद्यालयों में बच्चे ही समस्त कार्य कर रहे हैं ऐसी कितनी शिकायत विभाग को प्राप्त हुई? यदि नहीं, तो रतलाम मंदसौर जिले में किन-किन विद्यालयों में कौन-कौन भृत्य कार्यरत हैं? उन्हें 1 जुलाई के पश्चात् कितना कितना भुगतान किया गया?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) प्रकरण परीक्षणाधीन है। समय-सीमा बताना संभव नहीं है। (ख) प्रश्नांश (क) से संदर्भित भृत्यों ने 19 नंवबर 2016 को सूचना के अधिकार अंतर्गत लोक शिक्षण संचालनालय से कोई जानकारी नहीं चाही गई है। (ग) मंदसौर जिले में नियमित भृत्यों के 07 पद रिक्त है। 187 नियमित भृत्य कार्यरत है। स्कूलों में बच्चों से कार्य लिए जाने बाबत् कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। मंदसौर जिले में स्थानीय निधि से कुल 31 भृत्य कार्यरत है एवं 01 जुलाई 2016 के पश्चात् 450250/- का भुगतान किया गया। रतलाम जिलें में कोई संविदा भृत्य कार्यरत नहीं है।
सर्व शिक्षा अभियान के अन्तर्गत कराये गये कार्य
[स्कूल शिक्षा]
78. ( क्र. 1923 ) श्री प्रहलाद भारती : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सर्व शिक्षा अभियान के अन्तर्गत जनवरी 2009 से प्रश्न दिनांक तक पोहरी विधान सभा क्षेत्रान्तर्गत कौन-कौन से निर्माण कार्य (प्राथमिक, माध्यमिक, हाईस्कूल, हायरसेकण्डरी विद्यालय, अतिक्ति कक्ष, बाउण्ड्रीवाल) कितनी-कितनी लागत के कब-कब स्वीकृत किये गये? जानकारी ग्रामवार, पंचायतवार, विकासखण्डवार, कार्यवार पृथक-पृथक उपलब्ध करावें? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार स्वीकृत कार्यों में से कौन-कौन से कार्य पूर्ण किये जा चुके हैं व कौन-कौन से कार्य अपूर्ण है व उसके क्या कारण है? अपूर्ण कार्य कब तक पूर्ण कर लिये जावेंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) सर्व शिक्षा अभियान के अन्तर्गत जनवरी 2009 से स्वीकृत कार्यों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश ''क'' के उत्तर में कार्यवार विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। अपूर्ण कार्य को पूर्ण करने हेतु कार्यवाही प्रचलित है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
सर्व शिक्षा अभियान निर्मित शास. मा. शाला भवनों की स्थिति
[स्कूल शिक्षा]
79. ( क्र. 1939 ) श्री दिनेश कुमार अहिरवार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधान सभा क्षेत्र जतारा के जनपद-जतारा एवं जनपद-पलेरा में सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत शास. माध्य. शाला भवनों का निर्माण वर्ष 2010 से 2014 तक कितने भवन बनाये गये? (ख) क्या जनपद पंचायत पलेरा के ग्राम जवाहरपुरा में सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत शास. मा. शाला भवन का निर्माण छात्र-छात्राओं के बैठने के लायक है? (ग) अगर भवन बैठनें लायक है तो आज दिनांक तक भवन में शास. मा. शाला के छात्र-छात्राओं को क्यों नहीं बैठाया जा रहा? (घ) क्या सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत निर्मित शास. मा. शाला भवनों की जाँच करवाई जाएगी जिससे कर्मचारियों की लापरवाही उजागर हो सकेगी।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत प्रश्नांश अवधि में विधानसभा क्षेत्र जतारा के जनपद जतारा में 02 एवं जनपद पलेरा में 03 भवन बनाये गये। (ख) जनपद पंचायत पलेरा के ग्राम जवाहरपुरा में सर्व शिक्षा अभियान अंतर्गत निर्मित माध्यमिक शाला भवन पूर्ण है व छात्र/छात्राओं के बैठनें लायक है। । (ग) प्रश्नांश (ख) के उत्तर अनुसार भवन में माध्यमिक शाला संचालित हो रही है। (घ) सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत जिले में निर्मित शासकीय माध्यमिक शाला भवनों के संबंध में कर्मचारियों की लापरवाही प्रकाश में नहीं आई है।
राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान अंतर्गत व्यय राशि
[स्कूल शिक्षा]
80. ( क्र. 2003 ) श्री लाखन सिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ग्वालियर जिले में वर्ष 2014 – 15 से प्रश्न दिनांक तक राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान के तहत जिला कार्यलय को कितनी राशि आवंटित की गई? मदवार जानकारी दें। क्या शासन द्वारा उक्त राशि व्यय करने के नियम बनाये गए है? यदि हाँ, तो नियमों की प्रति उपलब्ध कराये? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या शासन द्वारा निर्धारित नियमों का पालन कर व्यय किया जा रहा है? यदि हाँ, तो प्राप्त मदवार राशि से कितनी राशि किस मद में व्यय की गई? व्यय की मदवार जानकारी उपरोक्तानुसार पृथक–पृथक देवें। (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार प्राप्त राशि एवं प्रश्नांश (ख) अनुसार व्यय राशि हेतु क्या क्रय समिति एवं सामग्री भौतिक सत्यापन समिति बनायी गयी है? यदि हाँ, तो जानकारी देवें? यदि नहीं, तो कारण बतावें? इसके लिए कौन अधिकारी जिम्मेदार है? शासन दोषी अधिकारी के विरद्ध क्या कार्यवाही करेगा? (घ) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या क्रय की गई कार्यलय सामग्री का भौतिक सत्यापन कराया है? यदि हाँ, तो भौतिक सत्यापन 01 अप्रैल 2014 से प्रश्न दिनांक तक की जानकारी देवें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकरी पुस्तकालयों में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। व्यय नियम पुस्तकालयों में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ख) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालयों में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ग) जी हाँ। जानकरी पुस्तकालयों में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (घ) जी हाँ। सामग्री का भौतिक सत्यापन समिति द्वारा अप्रैल 2015 एवं अप्रैल 2016 में किया गया है। जानकारी पुस्तकालयों में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-4 अनुसार है।
योजनाओं का क्रियान्वयन
[आदिम जाति कल्याण]
81. ( क्र. 2012 ) श्री सचिन यादव : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश सरकार द्वारा जनजाति एवं आदिवासी बाहुल्य जिलों में जनजातियों एवं आदिवासियों के लिए कौन-कौन सी योजनाएं क्रियान्वित की जा रही हैं? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार वर्ष 2013 से 2016 के दौरान इन्दौर संभाग अन्तर्गत जनजातियों के उत्थान एवं विकास हेतु राज्य एवं केन्द्र सरकार से प्राप्त कितनी-कितनी धनराशि किस-किस योजनाओं के माध्यम से खर्च की गई?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) आदिवासी विकास विभाग की योजनायें पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) प्रश्नांकित इन्दौर संभाग के जिलों में योजनावार व्यय की गई राशि की जानकारी- बडवानी की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''एक''/ खरगौन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''दो''/ खंडवा की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''तीन''/ बुरहानपुर की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''चार''/ इन्दौर की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''पाँच''/ झाबुआ की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''छ:''/ अलीराजपुर की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''सात''/ धार की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''आठ'' अनुसार है।
कर्मचारियों को समय पर पूर्ण राशि का प्रदाय
[स्कूल शिक्षा]
82. ( क्र. 2013 ) श्री सचिन यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत, सिविल, संविदा के पद पर पदस्थ कर्मचारियों को क्या समय पर प्रतिमाह निर्धारित वेतमान का भुगतान किया जा रहा है? (ख) उपस्थिति के उपरांत भी जिलों में कई कर्मचारियों के वेतन का भुगतान नहीं करने के क्या कारण है? (ग) उक्त वेतन भुगतान नहीं करने में लापरवाही किये जाने वाले अधिकारीगण व कर्मचारियों पर किस प्रकार की कार्यवाही की जायेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। नियमानुसार भुगतान हो रहा है। (ख) एवं (ग) उत्तरांश ‘क’ के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
एकलव्य विद्यालय शहडोल (धुरवार) में शिक्षकों की पदस्थापना
[आदिम जाति कल्याण]
83. ( क्र. 2084 ) श्रीमती प्रमिला सिंह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासन द्वारा एकलव्य विद्यालयों की स्थापना के क्या उद्देश्य है? कृपया शासन की नीति से अवगत करावें? (ख) एकलव्य विद्यालय शहडोल धुरवार में कितने शिक्षकों के कितने पद स्वीकृत किये गये हैं? स्वीकृत पदों में से कितने पद रिक्त है? विषयवार जानकारी दें? (ग) क्या शिक्षकों के अभाव में एकलव्य विद्यालय के स्थापना के उद्देश्यों की पूर्ति की जा सकती है? (घ) क्या एकलव्य विद्यालय शहडोल में रिक्त शिक्षकों के पदों की पूर्ति की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) अंदरूनी क्षेत्रों के अनुसूचित जनजाति वर्ग के विद्यार्थियों को गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा एवं व्यावसायिक शिक्षा तथा रोजगार प्राप्त करने हेतु योग्य बनाना उद्देश्य है। भारत सरकार की मार्गदर्शिका पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ग) जिला स्तर पर योग्य अतिथि अध्यापक/शिक्षकों की व्यवस्था कर उद्देश्य पूर्ति की जा रही है। (घ) रिक्त पद के विरूद्ध अतिथि शिक्षकों के माध्यम से गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रदान की जा रही है। पदों की पूर्ति शासन की प्रचलित नीति अनुरूप की जाती है।
अल्पसंख्यक महिला कल्याण योजना
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
84. ( क्र. 2099 ) श्री शैलेन्द्र पटेल : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या प्रदेश सरकार द्वारा अल्पसंख्यक महिलाओं के कल्याण के लिए कोई योजना संचालित की जा रही है? यदि हाँ, तो ब्यौंरा दें। (1) क्या केन्द्र शासन द्वारा वित्त पोषित कोई योजना का संचालन किया जा रहा है? यदि हाँ, तो योजना का ब्यौरा दें? (ख) क्या केन्द्र शासन द्वारा वित्त पोषित नई रोशनी नामक योजना का संचालन प्रदेश में किया जा रहा है? यदि हाँ, तो योजना के क्रियान्वयन की निगरानी किस विभाग द्वारा की जा रही है? योजना का क्रियान्वयन एजेंसी का भी ब्यौरा दें? (ग) क्या भोपाल संभाग में केन्द्र द्वारा वित्त पोषित अल्पसंख्यक महिला कल्याण की योजना नई रोशनी का संचालन किया जा रहा है? यदि हाँ, तो कहाँ-कहाँ कौन-कौन एजेंसी द्वारा योजना का संचालन किया जा रहा है? संस्थाओं के नाम, पता और प्रशिक्षण स्थलों का विवरण दें? (घ) भोपाल मुख्यालय पर किस-किस संस्था ने विगत 3 वर्ष में कितनी अल्पसंख्यक महिलाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया? ब्यौरा दें। (1) भोपाल में किस-किस संस्था को 3 वर्षों में कितनी-कितनी राशि आवंटित हुई ब्यौरा दें?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) जी हाँ। प्रदेश स्तर पर अल्पसंख्यक की बालिकाओं के लिये 04 जिलों में क्रमश: भोपाल, खरगौन, बुरहानपुर श्योपुर में 07 स्थानों पर अल्पसंख्यक कन्या छात्रावास स्वीकृत किए गये है। (I) जी हाँ। भारत सरकार द्वारा अल्पसंख्यक वर्ग की महिलाओं के नेतृत्व विकास हेतु नई रोशनी योजना का संचालन किया जा रहा है। योजना की प्रति जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ। योजना का संचालन भारत सरकार के स्तर से सीधे किया जा रहा है। (ग) एवं (घ) प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
डेड बाडी फ्रीजरों के संबंध में
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
85. ( क्र. 2100 ) श्री शैलेन्द्र पटेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन द्वारा शासकीय अस्पतलों में शवों को सुरक्षित रखने के लिए फ्रीजर लगाए जाने की योजना है? यदि हाँ, तो इसके लिये क्या मापदंड तय किए गए हैं? (ख) क्या सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों, सिविल अस्पतालों और जिला अस्पतालों में फ्रीजर लगाए जा रहे है? यदि हाँ, तो अभी तक कितने अस्पतालों में फ्रीजर लगाए जा चुके है? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) सीहोर जिले के किन-किन स्वास्थ्य केन्द्रों पर कितने-कितने फ्रीजर लगाए जा रहे हैं या लगाए जा चुके है? यदि नहीं, तो क्यों और यदि लगाये जायेंगे तो कब तक लगाए जाने की उम्मीद हैं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ, प्रत्येक जिला चिकित्सालय के लिए 02 नग (डबल बॉडी) मॉर्चूरी रेफ्रीजरेटर का मापदण्ड है। (ख) जी नहीं। यह व्यवस्था केवल जिला चिकित्सालय स्तर पर की गई है। (ग) प्रश्नांश (ख) के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
उपखण्ड स्तरीय समिति के अध्यक्ष
[आदिम जाति कल्याण]
86. ( क्र. 2162 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या होशंगाबाद संभाग के हरदा बैतूल एवं होशंगाबाद जिले में उपखण्ड स्तरीय वनाधिकार समिति के अध्यक्षों ने प्रमुख सचिव, आदिम जाति कल्याण विभाग के पत्र दिनांक 10 जून 2008 के अनुसार प्रश्नांकित दिनांक तक भी अभिलेखों एवं जानकारियां संबंधित सरपंच एवं सचिव को उपलब्ध नहीं करवाई है? (ख) 10 जून 2008 के पत्र में कौन-कौन सा अभिलेख एवं कौन-कौन सी जानकारी संबंधित सरपंच, सचिव एवं वनाधिकार समिति को उपलब्ध करवाये जाने के आदेश निर्देश दिये गये थे? (ग) हरदा, बैतूल एवं होशंगाबाद जिले के किस अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) के समक्ष कितने ग्रामों के निस्तार पत्रक एवं अधिकार अभिलेख में किन-किन अधिकारों एवं प्रयोजनों के लिए दर्ज कितनी जमीनों का आरक्षित वन बनाए जाने की क्या कार्यवाही वर्तमान में भी लंबित है? (घ) 10 जून 2008 के आदेश का पालन कर कब तक अभिलेखों एवं जानकारी संबंधित सरपंच, सचिव एवं वनाधिकार समिति को कब तक उपलब्ध करा दी जावेगी?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी नहीं। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''एक'' अनुसार है। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र '' दो'' अनुसार है। (घ) उत्तरांश ’’क’’ के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
वन अधिकार कानून 2006 में वन भूमि
[आदिम जाति कल्याण]
87. ( क्र. 2171 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जनवरी 2008 से लागू वन अधिकार कानून 2006 की धारा 2 में वन भूमि की क्या परिभाषा दी गई है? कानून में परिभाषित कितनी-कितनी वनभूमि हरदा, जिले के राजस्व अभिलेखों में किस-किस मद में वर्तमान में दर्ज है? (ख) धारा 2क अनुसार कितने ग्रामों की परिभाषित वन भूमि पर कितने दावेदारों के कितने आवेदन प्राप्त हुए, उनमें से कितने आवेदन मान्य एवं कितने आवेदन अमान्य किये गये। यह भूमि राजस्व अभिलेखों में किस-किस मद में दर्ज है। (ग) राजस्व अभिलेखों में दर्ज जिन भूमियों को धारा 2 के अनुसार परिभाषित वन भूमि माना है, उन भूमियों पर भूराजस्व संहिता 1959 की धारा 248 के अनुसार बनाए गए प्रकरणों की जिला अभिलेखागार की मौजवार पंजी से जानकारी संकलित नहीं किये जाने, जानकारी संबंधित ग्रामसभा या ग्राम पंचायत को उपलब्ध नहीं करवाये जाने का क्या कारण रहा है? (घ) मौजवार पंजी में दर्ज धारा 248 के प्रकरणों की जानकारी एवं ब्यौंरे संकलित कर संबंधित वन अधिकार, समिति, ग्रामसभा या ग्राम पंचायत को उपलब्ध करवाये जाने के संबंध में क्या कार्यवाही कब तक की जावेगी?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) वनभूमि की परिभाषा संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। वन भूमि की परिभाषा के अंतर्गत राजस्व विभाग द्वारा वन विभाग को सौंपी गई राजस्व विभाग को भारतीय वन अधिनियम 1927 के प्रावधानों के अंतर्गत अधिसूचित आरक्षित-आरक्षित वन, 741.79 वर्ग कि.मी. एवं संरक्षित वन 388.42 वर्ग कि.मी. है। आरक्षित/संरक्षित वन के लिये अधिसूचित करने हेतु भूमि के मद/प्रयोजन की जानकारी आवश्यक नहीं है। (ख) अधिनियम में परिभाषित वन भूमि पर 42 ग्रामों में 7158 दावे प्राप्त हुये उनमें से 5037 दावे मान्य किये गये तथा 2121 दावे अमान्य किये गये। अधिनियम में परिभाषित वनभूमि के वनाधिकारों की मान्यता की कार्यवाही की गई है। (ग) वनभूमि पर काबिज/अतिक्रमणकारियों की जानकारी ग्रामसभा/ग्राम पंचायतों को उपलब्ध कराई गई है। (घ) उत्तरांश 'ग' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विधायक के पत्रों के उत्तर देने संबंधी
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
88. ( क्र. 2218 ) श्री गिरीश भंडारी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा निर्वाचित विधायक के पत्रों के उत्तर देने संबंधी नियम क्या लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग पर भी लागू होते हैं? यदि हाँ, तो जानकारी दें? (ख) कंडिका (क) का उत्तर यदि हाँ, है तो प्रश्नकर्ता विधायक द्वारा आयुक्त महोदय लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण सतपुड़ा भवन को लिखे गये पत्र दिनांक 05.12.2016 तथा मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी महोदय जिला राजगढ़ को लिखे गये पत्र दिनांक 13.01.2016 का उत्तर सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा दिये गये निर्देश के अनुसार उपलब्ध करा दिया गया? यदि हाँ, तो जानकारी दें? (ग) कंडिका (ख) का उत्तर यदि नहीं, है तो क्या यह निर्वाचित विधायक की अवमानना एवं शासन के आदेश का उल्लंघन है? जानकारी दें। क्या शासन इस संबंध में कोई कार्यवाही करेगा? हां, तो कब तक? नहीं, तो क्यों नहीं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) से (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
संविदा शाला शिक्षकों की संविदा अवधि पूर्ण के बाद संविलियन
[स्कूल शिक्षा]
89. ( क्र. 2219 ) श्री गिरीश भंडारी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला राजगढ़ में संविदा शाला शिक्षकों जिनकी तीन वर्षीय संविदा अवधि पूर्ण हो चुकी है उनकी वर्गवार संख्या बतावें। (ख) प्रश्न की कंडिका (क) की उपलब्ध जानकारी अनुसार उक्त संविदा शाला शिक्षकों में से कितनो का संविलियन हो चुका है व कितने संविदा शाला शिक्षक संविलियन के लिये शेष हैं? (ग) प्रश्न की कंडिका (ख) की जानकारी अनुसार शेष रहे संविदा शाला शिक्षकों का संविलियन नहीं होने के क्या कारण है? संविलियन में दोषी अधिकारियों/कर्मचारियों के विरूद्ध क्या कार्यवाही की जावेगी? कार्यवाही नहीं की जावेगी तो क्यों नहीं? शेष रहे संविदा शाला शिक्षकों का संविलियन कब तक कर दिया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जिला राजगढ़ में तीन वर्ष सेवा अवधि पूर्ण करने वाले संविदा शाला शिक्षकों की श्रेणीवार संख्या वर्ग-1 की 13, वर्ग-2 की 170 एवं वर्ग-3 की 593 है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) शेष रहे कुल 129 संविदा शाला शिक्षकों के अध्यापक संवर्ग में संविलियन की कार्यवाही प्रचलन में है। यह एक सतत् प्रक्रिया है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
गुरूजियों की संविदा शिक्षक वर्ग-3 के संविलियन संबंधी
[स्कूल शिक्षा]
90. ( क्र. 2252 ) श्री राम लल्लू वैश्य : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश के समस्त गुरूजियों की संविदा शिक्षक वर्ग-3 को बिना गुरूजी पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण नियुक्त किये गये है, को दिनांक 22.10.2011 से संविदाकाल अवधि की गणना कर समस्त गुरूजियों को डी.एड. के आधार पर दिनांक 22.10.2014 से सहायक अध्यापन का लाभ प्रदान कर संविलियन किये जाने की कार्यवाही कब तक की जावेगी समय-सीमा बतायें? (ख) गुरूजियों के संविलियन के संबंध में प्रश्नकर्ता द्वारा माननीय शिक्षा मंत्री को दिनांक 12.1.2017 को एवं दिनांक 16.1.2017 को पत्र लिखा था, क्या कार्यवाही की गई है तथा कब तक संविलियन किया जावेगा? (ग) सिंगरौली जिले में कितने गुरूजियों का संविलियन किया गया सूची बताये?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) म.प्र. शासन स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश क्रमांक एफ 44-6/2014/20-2 भोपाल,दिनांक 10/02/2014 एवं आदेश क्रमांक एफ 44-6/2014/20-2 भोपाल दिनांक 09.12.2014 अनुसार गुरूजियों को अध्यापक संवर्ग में संविलियन किये जाने की कार्यवाही की जा रही है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ‘ एवं ‘ब‘ अनुसार है। (ख) परीक्षण कर नियमानुसार कार्यवाही प्रचलन में है। (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
छतरपुर जिले में नर्सिंग होम/पैथालॉजी लैब में अनियमितता
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
91. ( क्र. 2268 ) श्री मानवेन्द्र सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छतरपुर जिले में कितने पंजीकृत निजी नर्सिंग होम, निजी अस्पताल, पैथालॉजी लैब एवं सोनोग्राफी सेंटर हैं? उनकी संख्या, नाम एवं संचालकवार जानकारी दी जाये। (ख) क्या इनमें से कई नर्सिंग होम, अस्पताल, लैब में शासन की गाईड-लाईन का खुलेआम उल्लंघन हो रहा है? प्रश्नांश (क) के क्रम में इनमें कार्यरत मेडिकल, पैरामेडिकल एवं नर्सिंग स्टॉफ की नामवार जानकारी दी जाए। (ग) उक्त सभी संस्थानों का विगत तीन वर्षों में किस-किस अधिकारी द्वारा कब-कब निरीक्षण एवं आकस्मिक जाँच की गई? कितने संस्थानों का संचालन नियम विरूद्ध होने पर क्या-क्या कार्यवाही की गई? (घ) क्या सभी संस्थानों में मानव स्वास्थ्य को देखते हुये अस्पताल के कचरे का निपटान नियमानुसार किया जा रहा है? पार्किंग सुविधा, विभिन्न पैथालॉजी जांचों की दरों की रेट लिस्ट दृश्य स्थान पर लगाई गई है? (ड.) यदि नहीं, तो क्या स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों द्वारा नियम विरूद्ध संचालित ऐसे संस्थानों को सहयोग कर जनस्वास्थ्य से खिलवाड़ किया जा रहा है? यदि हाँ, तो क्या इनकी उच्च स्तरीय जाँच की जाएगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) छतरपुर जिले में कुल पंजीकृत निजी नर्सिंग होम-13, पैथालॉजी लैब-18 एवं सोनोग्राफी सेंटर-08 है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- ’’अ’’ अनुसार है। (ख) जी नहीं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- ’’ब’’ अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- ’’स’’ अनुसार है। (घ) जी नहीं। जी हाँ। (ड.) जी नहीं, बायोमेडिकल वेस्ट मेनेजमेन्ट नियमों का पालन नहीं करने पर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा निजी नर्सिंग होम/अस्पताल/पैथालॉजी लैब संचालकों को नोटिस दिये गये है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
आयुष औषधालय के संबंध में
[आयुष]
92. ( क्र. 2271 ) श्री मानवेन्द्र सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधान सभा क्षेत्र महाराजपुर में आयुष औषधालय कहाँ-कहाँ संचालित है और उन औषधालयों में वर्ष 2015 से प्रश्न दिनांक तक कितनी-कितनी राशि उपलब्ध कराई गई? (ख) विधानसभा महाराजपुर में आयुष औषधालयों में वर्ष 2015 से प्रश्न दिनांक तक कितने रोगियों को औषधि का वितरण किया गया है? औषधालयवार पृथक-पृथक जानकारी उपलब्ध करावें? (ग) क्या आयुष औषधालय में जाने वाले रोगियों को औषधि के अभाव में उनका ईलाज न होने से रोगी मजबूरन एलोपैथी पद्धति से ईलाज लेते हैं? (घ) विभाग द्वारा रोगियों के लिए ऐसा कोई कार्यक्रम चलाया जावेगा जिससे कि आमजन आयुष औषधि पर विश्वास जागृत कर औषधालयों का लाभ उठा सकेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) एवं (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ग) जी नहीं। (घ) शासकीय योजनाओं एवं आयुष शिविरों द्वारा।
शिक्षा की गुणवत्ता हेतु शिक्षकों से शिक्षा देने की व्यवस्था
[स्कूल शिक्षा]
93. ( क्र. 2280 ) श्री सुखेन्द्र सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या स्कूल शिक्षा विभाग के बोर्ड की लिखित एवं प्रायोगिक परीक्षा शुरू होने वाली है जिसके लिये शिक्षकों की स्कूलों में सख्त जरूरत हैं? इन शिक्षकों को डी.ई.ओ., बी.ई.ओ. के विभिन्न कार्यालयों से लेकर जिला प्रशासन तक के कार्यालयों में संलग्न किया गया है। (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में क्या लोक शिक्षण संचालनालय से अटैच व संलग्नीकरण शिक्षकों को उनके स्कूल में भेजने का निर्देश जारी किया गया किंतु कार्यवाही कागज तक ही सीमित रह गया? इन शिक्षकों को कार्य कागज पर मुक्त कर दिया गया किंतु वे कार्यालय के काम निपटाने में लगे हुये है। (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के प्रकाश में विभिन्न कार्यालयों द्वारा प्रमाणपत्र उपलब्ध करावें की संलग्नीकरण व अटैच किये हुये शिक्षक कार्य मुक्त कर दिये गये है अब एक भी शेष नहीं है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। शेषांश की जानकारी एकत्रित की जा रही है। (ख) जी हाँ। आदेश जारी किया गया है। शेषांश की जानकारी एकत्रित की जा रही है। (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
शिक्षकों के वेतन एवं अन्य भुगतान में की गई देरी पर जिम्मेदारी का निर्धारण
[स्कूल शिक्षा]
94. ( क्र. 2281 ) श्री सुखेन्द्र सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या रीवा जिले के अशासकीय एवं शासकीय विद्यालयों के शिक्षकों एवं अन्य सेवारत कर्मचारियों को वेतन भुगतान, छठवां वेतनमान, एरियर्स, समय वेतनमान, सम्मिलियन आदि के भुगतान के लिये मध्यप्रदेश शिक्षक संघ को मध्य दिसंबर में बैठक कर आंदोलन करने की धमकी देनी पड़ी? (ख) प्रश्नांश ''क'' के प्रकाश में अशासकीय अनुदान प्राप्त विद्यालयों के शिक्षक एवं अन्य स्टाफ को माह दिसंबर तक लगभग सात माह का वेतन व अन्य भुगतान प्राप्त नहीं हुआ एवं शासकीय विद्यालयों के शिक्षक एवं अन्य स्टाफ को माह दिसंबर तक लगभग चार माह का वेतन व अन्य भुगतान प्राप्त नहीं हुआ? (ग) प्रश्नांश ''क'' एवं ''ख'' के प्रकाश में क्या जिला शिक्षा अधिकारी व विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी जिम्मेदार है? यदि नहीं, तो कौन जिम्मेदार है? (घ) प्रश्नांश (क), (ख), (ग) के प्रकाश में दोषी के खिलाफ कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो समय-सीमा बतावें? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी नहीं। (ख) शासकीय विद्यालय में माह जनवरी 2017 तक एवं अशासकीय अनुदान प्राप्त प्राथमिक/माध्यमिक/हाईस्कूल एवं उ.मा.वि. शालाओं में भी माह जनवरी 2017 तक का वेतन भुगतान एवं छठवें वेतनमान की द्वितीय किस्त का भुगतान किया जा चुका है। (ग) एवं (घ) बिन्दु 'ख' के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नवीन उपस्वास्थ्य केन्द्रों की स्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
95. ( क्र. 2361 ) डॉ. राजेन्द्र पाण्डेय : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन द्वारा प्रदेश में 2000 नवीन उप स्वास्थ्य केन्द्रों की स्थापना करने का निर्णय दिनांक 21.06.2016 को लिया जाकर केन्द्रों के भवन निर्माण एवं फर्नीचर उपकरण हेतु आवश्यक व्यय की व्यवस्था राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन अंतर्गत की जाना भी सुनिश्चित किया गया है? (ख) यदि हाँ, तो लगभग 7-8 माह व्यतीत हो जाने की स्थिति में प्रदेश में कितने स्थानों पर उप स्वास्थ्य केन्द्र प्रारंभ किये जा चुके है? साथ ही शहरी केन्द्र भी प्रारंभ करना घोषित किया गया था? (ग) यदि हाँ, तो जावरा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत जावरा नगर शहरी केन्द्र पिपलौदा तहसील अंतर्गत ग्राम उम्मेदपुरा, चिपिया एवं सुजापु तथा तहसील जावरा के ग्राम झालवा, मोरिया, बहादुरपुर एवं ग्राम बिनौली केन्द्रों को क्या प्रारंभ कर दिया गया है? (घ) क्या अप्रारंभ एवं प्रारंभ किये गए केन्द्रों पर भवन निर्माण, फर्नीचर, उपकरण इत्यादि के साथ ही स्वास्थ्य सेवाओं एवं योजनाओं हेतु क्या पर्याप्त संसाधन भी बजट सहित उपलब्ध वित्त विभाग के क्र. 151/आर.एचएच 9/बी 6/16 दिनांक 25/06/2016 के अनुक्रम में जारी कर दिया गया है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) कोई नहीं। जी हाँ। (ग) जावरा नगर में शहरी प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र प्रारंभ कर दिया गया है। तहसील पिपलौदा तथा जावरा के उल्लेखित ग्रामों में स्वीकृत नवीन उपस्वास्थ्य केन्द्रों को प्रारंभ नहीं किया गया है। (घ) जी नहीं।
अपूर्ण कार्यों को पूर्ण किया जाना
[स्कूल शिक्षा]
96. ( क्र. 2362 ) डॉ. राजेन्द्र पाण्डेय : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या रतलाम जिले के प्राथमिक एवं माध्यमिक विद्यालयों के भवनों की कमी, शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों अतिरिक्त कक्षों की कमी, प्रधानाध्यापक कक्षों की कमी, बाउण्ड्रीवॉल, शौचालय, पेयजल सुविधा, शाला भवन मरम्मत एवं बी.आर.सी. आगमेटेशन हाल इत्यादि कर्मियों को दूर करने हेतु सर्व शिक्षा अभियान द्वारा स्वीकृति दी गई थी? (ख) यदि हाँ, तो वर्ष 2014-15 से प्रश्न दिनांक तक उपरोक्त समस्त प्रकार की आवश्यकता की पूर्ति हेतु कब-कब किन-किन स्थानों पर उल्लेखित कार्यों हेतु किस-किस दिनांक को स्वीकृति दी जाकर कितना-कितना बजट स्वीकृत किया गया था? (ग) क्या रतलाम जिले में सर्व शिक्षा अभियान अंतर्गत उल्लेखित करोड़ो रूपये के अनेक निर्माण कार्यों हेतु एजेंसी द्वारा राशि आहरित कर लिये जाने के बावजूद भी कार्य अधूरे है? (घ) यदि हाँ, तो बताएं कि सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत वर्ष 2014-15 से प्रश्न दिनांक तक कितने कार्यों के लिये बजट स्वीकृत होकर कितना आहरित हुआ? कितने कार्य पूर्ण हुए कितने अपूर्ण रहें, कितने अप्रारंभ है? साथ ही इस हेतु कोई विभागीय जाँच एजेंसी कार्य भी कर रही है अथवा नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) भारत शासन से कार्ययोजना अनुमोदन अनुसार रतलाम जिले की शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं में सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत स्वीकृति जारी की गई थी। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'अ' अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- 'ब' अनुसार है। (घ) सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत वर्ष 2014-15 से प्रश्न दिनांक तक स्वीकृत बजट कार्यों के पूर्ण अपूर्ण तथा अप्रारंभ की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- 'स' अनुसार है। निर्माण कायों के मॉनिटरिंग हेतु जिले में सर्व शिक्षा अभियान अंतर्गत 01 सहायक यंत्री तथा विकासखंड स्तर पर उपयंत्री कार्यरत है।
बंद स्कूल को पुनः चालू किया जाना
[स्कूल शिक्षा]
97. ( क्र. 2375 ) श्री दिव्यराज सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विकासखण्ड जवा अन्तर्गत मगड़ौर अन्तर्गत शासकीय प्राथमिक पाठशाला मगड़ौर साहू पूर्वा कक्षा 1 से कक्षा 5 वीं तक पिछले 20 वर्षों से नियमित रूप से संचालित था तथा जिसका संकुल केन्द्र डभौरा था। (ख) वर्ष 2016-17 में कूट रचना कर छात्रों की संख्या पोर्टल में 0 दिखाकर विद्यालय को बंद कर दिया गया जबकि छात्र संख्या कुल 38 थी। संबंधित शिक्षक व वी.आर.सी. द्वारा शासन को गलत जानकारी देकर गुमराह किया गया। जबकि उक्त गांव की आबादी लगभग 550 है। (ग) क्या उक्त प्राथमिक पाठशाला को पुनः प्रारंभ किया जावेगा? शासन को गलत जानकारी प्रेषित करने वाले संबंधित अधिकारी/कर्मचारी पर विभाग द्वारा क्या दण्डात्मक कार्यवाही की जावेगी? (घ) क्या ग्राम सभा मगड़ौर द्वारा प्रस्ताव पारित कर वी.आर.सी. को विद्यालय पुनः प्रारंभ करने का प्रस्ताव दिया गया, क्योंकि इस विद्यालय के बंद होने से दूसरे विद्यालय तक पहुचंने में दो रेलवे क्रासिंग को पार करना पड़ता है जिससे कभी भी छोटे-छोटे बच्चों के साथ दुर्घटना घटित हो सकती है। ऐसी स्थिति में क्या विभाग जिम्मेदारी लेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी, हाँ। (ख) जी, नहीं। म.प्र. शासन स्कूल शिक्षा विभाग पत्र क्रमांक/एफ-44/4/2013/20-2/8566 भोपाल, दिनांक 12.09.2013 की कण्डिका-4 अनुसार ऐसी प्राथमिक शाला जहां नामांकन 20 से कम है तथा माध्यमिक शाला जहां नामांकन 10 से भी कम हो ऐसी शालाएं निर्धारित मापदण्ड पूर्ण नहीं करती है तथा इनसे शासन पर अत्यधिक वित्तीय भार आता है ऐसी स्थिति में इन शालाओं का युक्ति-युक्तकरण कर ऐसे स्थानो पर प्रारम्भ किया जाए, जहां पर शिक्षा का अधिकार नियम-2011 अन्तर्गत पड़ोस की परिभाषा अनुरूप राज्य शासन द्वारा नई शाला प्रारंभ करने की आवश्यकता है। इसी अनुक्रम में वर्ष 2015-16 में विद्यालय में छात्र संख्या पोर्टल पर 10 दर्ज थी। (ग) जी, नहीं। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है। (घ) शिकायत के आधार पर प्राथमिक शाला मगडौर साहू पूर्वा की जाँच कराई गई। जाँच में पाया गया कि प्राथमिक शाला मगडौर साहू पूर्वा के एक कि.मी. की परिधि में अन्य प्राथमिक शाला चुनगी तथा प्राथमिक शाला मगडौर संचालित होने के कारण दर्ज बच्चों को प्रवेश दिलाया गया है।
प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र चैखण्डी में चिकित्सक की पदस्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
98. ( क्र. 2380 ) श्री दिव्यराज सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जवा विकासखण्ड अन्तर्गत प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र चैखण्डी में चिकित्सक का पद रिक्त है? यदि हाँ, तो उक्त स्वास्थ्य केन्द्र में चिकित्सक की पदस्थापना कब तक की जा सकेगी? (ख) विकासखण्ड जवा अन्तर्गत प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों एवं चिकित्सालयों में कुल कितने पद रिक्त हैं? इन रिक्त पदों को कब तक भरा जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। प्रदेश में चिकित्सकों की कमी के कारण निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है। (ख) विकासखण्ड जवा अंतर्गत विशेषज्ञों के 03 तथा चिकित्सा अधिकारी के 03 पद रिक्त हैं। विभाग रिक्त पदों की पूर्ति हेतु निरंतर प्रयासरत् है, वर्तमान में 1896 पदों हेतु मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग में साक्षात्कार की कार्यवाही प्रचलन में है, पदपूर्ति हेतु निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है।
स्कूलों की वार्षिक कार्य योजना
[स्कूल शिक्षा]
99. ( क्र. 2415 ) श्री कुँवरजी कोठार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश शासन ने जिला शिक्षा केन्द्र राजगढ़ में वर्ष 2016-17 हेतु किस-किस मद में कितनी-कितनी राशि आवंटित की है एवं कितनी राशि व्यय हुई है? योजनाओं की लक्ष्य पूर्ति बतलावें? (ख) प्रश्नांश “क” में सिविल वर्क के तहत कितने-कितने प्राथमिक, माध्यमिक शालाओं की दशा बदलने हेतु नवीन शाला भवनों का निर्माण, अतिरिक्त कक्षों, बाउण्ड्रीवाल, छात्र-छात्राओं के लिए शौचालयों का निर्माण, शाला भवनों की मरम्मत व शुद्ध पेयजल की व्यवस्था की गई है? इन पर कितनी-कितनी राशि व्यय हुई है? तहसीलवार जानकारी देवें? (ग) प्रश्नांश “क” में वर्ष 2017-18 की वार्षिक कार्य योजना में विधानसभा क्षेत्र सारंगपुर के कितने प्राथमिक, माध्यमिक शालाओं में कितनी-कितनी राशि के सिविल कार्य कराना स्वीकृत/प्रस्तावित है? कितने स्कूल भवनविहीन हैं, कितने स्कूलों में शुद्ध पेयजल व छात्र-छात्राओं के लिए शौचालयों की व्यवस्था नहीं है एवं क्यों? इसके लिए क्या कार्यवाही की गई है? यदि नहीं, तों, क्यों नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) प्रदेश शासन द्वारा जिला परियोजना समन्वयक, जिला शिक्षा केन्द्र राजगढ़ को वर्ष 2016-17 के लिए मदवार आंवटित राशि, व्यय एवं लक्ष्य पूर्ति का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। (ख) प्रश्नांश 'क' में सिविल वर्क के तहत शासकीय प्राथमिक, माध्यमिक शालाओं की दशा बदलने हेतु नवीन शाला भवनों का निर्माण, अतिरिक्त कक्ष, बाउण्ड्रीवाल, छात्र-छात्राओं के लिए शौचालयों का निर्माण, शाला भवनों की मरम्मत व शुद्ध पेयजल की व्यवस्था की तहसीलवार जानकारी पुस्तकालय में रखे पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है। (ग) प्रश्नांश 'क' में वर्ष 2017-18 में की वार्षिक कार्ययोजना में विधानसभा क्षेत्र सारंगपुर में शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं में 54 अतिरिक्त कक्ष की राशि रूपयें 194.40 लाख, 184 शाला परिसर में बाउण्ड्रीवाल निर्माण की राशि रूपये 9015.26 लाख एवं छात्र-छात्रा संख्या 200 के मान से 8 शौचालय राशि रूपये 10.71 लाख के कार्य स्वीकृति हेतु प्रस्तावित है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'स' अनुसार है। समस्त शालाओं के पास भवन, पेयजल छात्र-छात्राओं के लिए शौचालयों की व्यवस्था है। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है।
कर्मचारियों की पदस्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
100. ( क्र. 2426 ) श्री रामपाल सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शहडोल जिला अंतर्गत समस्त संचालित चिकित्सालयों में विभिन्न पदों पर कितनें पदो पर नियमित एवं संविदा कर्मचारी कार्यरत हैं। चिकित्सालयवार कार्यरत कर्मचारियों की पदस्थापना दिनांक एवं पदस्थापना स्थल तथा किस कार्य हेतु पदस्थापित किया गया है। साथ ही वर्तमान में कर्मचारियों का कार्य स्थल, कर्मचारियों के मुख्यालय में रहनें का प्रमाणीकरण सहित विस्तृत जानकारी उपलब्ध करायी जावे। (ख) प्रश्नांश ‘क’ अनुसार चिकित्सालयों में ऐसे कितनें नियमित एवं संविदा कर्मचारी है जिन्हे मूल पदस्थापना स्थल से अन्यत्र स्थल पर कार्य कराया जा रहा है।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘‘अ’’ एवं ‘‘ब’’ अनुसार है। चिकित्सालयवार कार्यरत कर्मचारियों की पदस्थापना दिनांक, पदस्थापना स्थल, कार्य एवं कर्मचारियों के मुख्यालय में रहने संबंधी प्रमाणीकरण की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ’’अ’’ एवं ’’ब’’ अनुसार है। (ख) उत्तरांश (क) अनुसार सभी नियमित एवं संविदा कर्मचारी से मूल पदस्थापना स्थल पर ही कार्य लिया जा रहा है।
वेतन निर्धारण के संबंध में
[स्कूल शिक्षा]
101. ( क्र. 2427 ) श्री रामपाल सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. पंचायत अध्यापक संवर्ग (नियोजन एवं सेवा शर्ते) नियम २००८ के अधीन कार्यरत अध्यापक संवर्ग के कर्मचारियों को ६वें वेतन का निर्धारण कर वर्ष २०१० से दिये जा चुके क्रमोन्नति लाभ प्राप्त अध्यापक संवर्ग को शहडोल जिले के ब्यौहारी जनपद क्षेत्रांतर्गत दिया जा रहा है। (ख) क्या ६वें वेतनमान के आदेश दिनांक १५-१०-२०१६ के अनुसार दिनांक ३१-१२-२०१५ की स्थित में विद्यमान वेतनमान में प्राप्त वेतन के आधार पर दिनांक ०१-०१-२०१६ को ब्यौहारी जनपद क्षेत्र में वेतन निर्धारित किया गया है। (ग) यदि प्रश्नांश ‘क’ एवं ‘ख’ हाँ तो की गई वेतन निर्धारण की जानकारी समस्त शासनादेश सहित उपलब्ध करायी जावे। यदि नहीं, तो क्यों और कब तक की जावेगी।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) विभागीय आदेश की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। संकुल प्राचार्यों द्वारा अध्यापक संवर्ग को छठवें वेतनमान में वेतन निर्धारण कर अनुमोदन हेतु सेवा पुस्तिका स्थानीय संपरीक्षा निधि कार्यालय रीवा को भेंजी गई है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
दवाइयों व टीकाकरण की डाटा एन्ट्री करवाई जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
102. ( क्र. 2452 ) श्री सुदर्शन गुप्ता (आर्य) : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विभाग द्वारा आयुष डॉक्टर, फार्मासिस्टों, स्टाफ नर्सों से विभाग में प्राप्त होने वाली दवाइयों व टीकाकरण से सम्बंधित सभी कार्यों की डाटा एन्ट्री का कार्य भी मूल दायित्व के अतिरिक्त करवाये जाने संबंधी आदेश जारी किया गया है? (ख) यदि हाँ, तो क्या? इनके द्वारा डाटा एन्ट्री के कार्य करने से इनके मूल दायित्व में प्रतिकूल प्रभाव नहीं पड़ेगा? (ग) क्या प्रश्नांश (क) अनुसार किये जाने वाला डाटा एन्ट्री का कार्य कम्प्यूटर ऑपरेटरों के द्वारा करवाया जाना उचित नहीं होगा? यदि हाँ, तो क्या विभाग द्वारा इस कार्य हेतु विभाग में कम्प्यूटर ऑपरेटरों की भर्ती की जावेगी अथवा बाहरी स्रोत से कार्य करवाना उचित होगा, जिससे बेरोजगारों को रोजगार के अवसर प्राप्त हो सके?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी नहीं, संबंधितों को आवंटित स्वयं के कार्यों की डाटा एंट्री करने हेतु निर्देश दिए गए है। (ख) जी नहीं, यह केवल वैकल्पिक व्यवस्था है। (ग) जी नहीं, उक्त व्यवस्था वैकल्पिक है। जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक कल्याण की योजनाएं
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
103. ( क्र. 2463 ) श्री रामकिशन पटेल : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक कल्याण विभाग की जिला रायसेन अंतर्गत उदयपुरा विधान सभा क्षेत्र में कौन-कौन सी योजनाएं शासन द्वारा संचालित हैं? (ख) इन योजनाओं से कितने व्यक्तियों को लाभ मिल रहा है? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) विधानसभा क्षेत्रवार योजना का संचालन नहीं किया जाता है। प्रदेश में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक कल्याण की संचालित योजनाओं की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''एक'' अनुसार है। (ख) विभाग द्वारा उदयपुरा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत वर्ष 2016-17 में अब तक योजनावार लाभांवित हितग्राहियों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''दो'' अनुसार है।
कर्मचारियों का स्थानान्तरण
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
104. ( क्र. 2474 ) श्री कालुसिंह ठाकुर : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) धरमपुरी विधान सभा क्षेत्र में स्वास्थ्य विभाग अंतर्गत कितने कर्मचारी कार्यरत है तथा कार्यरत कर्मचारी कब से पदस्थ है, संस्थावार बतावें? (ख) क्या शासन नियमानुसार प्रत्येक शासकीय कर्मचारी को एक स्थान पर कार्य करते हुए तीन वर्ष अथवा अधिकतम पाँच वर्ष की अवधि पूर्ण कर लेने पर उन्हें अन्यत्र स्थानांतरित किये जाने के नियम है? (ग) यदि हाँ, तो विभाग द्वारा उक्त नियमों का कितना पालन किया गया है व किन-किन संस्थाओं से कितने कर्मचारियों का उक्त नियम के तहत स्थानांतरण किया गया है? यदि नहीं, तो उसका कारण बतावें?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। म.प्र.शासन सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा जारी स्थानांतरण नीति वर्ष 2015-2016 दिनांक 15 अप्रैल 2015 में उल्लेखित नियमानुसार क्रय/स्टोर/स्थापना शाखा में कार्यरत अधिकारियों/कर्मचारियों को सामान्यतः 03 वर्ष की अवधि पूर्ण होने पर अन्य शाखा में/ अन्य स्थान पर पदस्थ किये जाने के निर्देश है। (ग) उत्तरांश ‘‘ख’’ के अनुक्रम में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय शैक्षणिक संस्थाओं द्वारा क्रय सामाग्री
[आदिम जाति कल्याण]
105. ( क्र. 2475 ) श्री कालुसिंह ठाकुर : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) धरमपुरी विधानसभा क्षेत्र के विकास खण्ड शिक्षा कार्यालय धरमपुरी एवं नालछा तथा विकासखण्ड धरमपुरी एवं नालछा क्षेत्र अंतर्गत संचालित समस्त उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों एवं हाईस्कूलों के द्वारा विगत 05 वर्षों में कितनी-कितनी, व कौन-कौन सी सामाग्री वर्षवार क्रय की गई है? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित उक्त क्रय की गई सामाग्री टेन्डर बुलाकर खरीदी अथवा बाजार दर पर? समस्त क्रय सामाग्री की जानकारी देवें?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' एवं ''ब'' अनुसार है।
मांगलिक भवनों का निर्माण
[अनुसूचित जाति कल्याण]
106. ( क्र. 2483 ) श्री हरदीप सिंह डंग : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अनुसूचित बाहुल्य क्षेत्र में मांगलिक कार्यों हेतु किस योजना के अन्तर्गत मांगलिक एवं अम्बेडकर भवनों का निर्माण किया जाता है? (ख) विगत 3 वर्षों में मन्दसौर जिले में अनुसूचित बाहुल्य क्षेत्रों में कितने मांगलिक एवं अम्बेडकर भवनों का निर्माण किया गया है? विधानसभा क्षेत्रवार ग्राम के नाम सहित जानकारी दें। यदि कार्य प्रस्तावित है तो उनकी जानकारी देवें। (ग) विभाग द्वारा अघोषित अनुसूचित बस्तियों में मांगलिक भवन एवं मिनी मांगलिक भवन निर्माण करने हेतु राशि स्वीकृत की जा सकती है या नहीं? (घ) विभाग द्वारा घोषित अजा बाहुल्य ग्रामों/नगरीय क्षेत्र में मांगलिक भवन निर्माण हेतु कितनी-कितनी राशि स्वीकृत की जाती है?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) म.प्र. अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजनांतर्गत मांगलिक एवं डॉ. अम्बेडकर भवनों का निर्माण किया जाता है। (ख) 04 मांगलिक भवन स्वीकृत किये गये हैं। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी नहीं। (घ) अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजनान्तर्गत अनुसूचित जाति बाहुल्य ग्रामों/नगरीय क्षेत्रों में मांगलिक भवनों के निर्माण कार्य हेतु जिला स्तर पर अधिकतम राशि रू. 10.00 लाख तक की स्वीकृति के अधिकार हैं। इससे अधिक राशि की स्वीकृति के अधिकार शासन को हैं।
राशि वितरण हेतु जनप्रतिनिधियों की अनुशंसा
[अनुसूचित जाति कल्याण]
107. ( क्र. 2484 ) श्री हरदीप सिंह डंग : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सुवासरा विधानसभा क्षेत्र के 40 प्रतिशत से अधिक अजा बाहुल्य ग्रामों में वितरित की गई राशि का आधार क्या है? जिन ग्रामों में राशि वितरित की गई है उनके नाम एवं राशि बतावें। 40 प्रतिशत से अधिक अजा बाहुल्य ग्रामों की सूची में सम्मिलित शेष ग्रामों में राशि उपलब्ध न होने का कारण स्पष्ट करें। (ख) क्या विभाग द्वारा घोषित अजा बाहुल्य ग्रामों के 40 प्रतिशत के घटते या बढ़ते क्रम में राशि वितरित की गई है? (ग) विभाग द्वारा घोषित 40 प्रतिशत अजा बाहुल्य ग्राम में विकास कार्य हेतु जो राशि वितरण की गई है उनमें ऐसे कितने ग्राम हैं जिनमें एक से अधिक बार राशि वितरित की गई तथा ऐसे कितने ग्राम हैं जिनमें एक बार भी राशि वितरित नहीं की गई हैं? ग्रामवार सूची उपलब्ध करावें। (घ) विगत दो वर्षों में मन्दसौर जिले के अजा बाहुल्य ग्रामों में विकास कार्यों हेतु वितरित की गई राशि हेतु प्राप्त जनप्रतिनिधियों के अनुशंसा पत्रों की प्रतिलिपि उपलब्ध करावें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजना नियम 2014 के आधार पर राशि वितरित की गई है। विधानसभा क्षेत्र सुवासरा अंतर्गत ग्रामों में स्वीकृत कार्यों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। जिले को प्राप्त आवंटन सीमा में कार्य स्वीकृत किये जाते हैं। (ख) जी हाँ। घटते क्रम में राशि वितरित की गई है। (ग) विधानसभा क्षेत्र सुवासरा में अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजनान्तर्गत 40 प्रतिशत से अधिक अनुसूचित जाति बाहुल्य ग्रामों में एक से अधिक बार स्वीकृत ग्रामों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है तथा ऐसे ग्राम जिसमें एक बार भी राशि स्वीकृत नहीं की गई, की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘स’ अनुसार है। (घ) जनप्रतिनिधियों के अनुशंसा पत्रों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘द’ अनुसार है।
छात्रावास की अव्यवस्थाएं
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
108. ( क्र. 2506 ) श्री भारत सिंह कुशवाह : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) पिछड़ा वर्ग सम्भागीय पोस्ट मैट्रिक बालक छात्रावास दुरावली मुरार ग्वालियर की स्थापना कब हुई? क्या वर्तमान में छात्रों को मूलभूत सुविधायें मिल रही हैं? (ख) क्या उक्त छात्रावास में बिजली की वायरिंग जली हुई एवं खराब है? कब तक ठीक कराया जायेगा? क्या सीवर लाईन भी बंद है? (ग) इस छात्रावास भवन की पुताई कब कराई गई? (घ) क्या अधीक्षक यहीं रहते है या कभी-कभी आते हैं क्या अन्य असामाजिक तत्व अवैध रूप से प्रवेश करते है तथा अव्यवस्था फैलाते है कब तक शासन इस पर अंकुश लगायेगा? विगत एक वर्ष में कब-कब वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा इसका निरीक्षण किया गया तथा क्या कमी निरीक्षण के दौरान नहीं दिखी? विभाग द्वारा इन कमियों को दूर करने के लिये कब-कब क्या प्रयास किये गये?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) स्थापना अक्टूबर, 2007 में हुई है। जी हाँ। (ख) जी नहीं। उक्त छात्रावास में बिजली की वायरिंग कहीं'-कहीं जल गई थी, जिसे दुरूस्त करा दिया है। वर्तमान में छात्रावास की सीवर लाईन चालू है। (ग) वर्ष 2010-2011 में। (घ) जी हाँ, छात्रावास में अधीक्षक नियमित रूप से रहते हैं। असामाजिक तत्वों के प्रवेश का कोई प्रकरण प्रकाश में नहीं आया है, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। विगत एक वर्ष में छात्रावास का निरीक्षण प्रतिमाह विभाग के निरीक्षक एवं सहायक संचालक द्वारा किया जाता है, पिछले माह मुख्यालय से गये अधिकारी द्वारा भी निरीक्षण किया गया है। निरीक्षण के दौरान मूल रूप से छात्रावास में पानी की कमी दिखी जिसकी पूर्ति हेतु टंकी का निर्माण कराया गया है, सीवर लाईन बदल दी गई है।
भवनविहीन विद्यालय
[स्कूल शिक्षा]
109. ( क्र. 2516 ) श्री संजय शर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नरसिंहपुर जिले में भवन विहीन हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों के निर्माण की क्या योजना है? (ख) उक्त जिलों में किन-किन विद्यालयों में शौचालय एवं पेयजल की व्यवस्था नहीं है तथा क्यों? कारण बतायें तथा इस संबंध में विभाग द्वारा क्या-क्या कार्यवाही की गई? (ग) विद्यालय की मूल्यवान भूमि पर अतिक्रमण रोकने एवं विद्यालय की आय बढ़ाने हेतु व्यावसायिक कॉम्पलेक्स निर्माण ''एस.एम.डी.सी. अथवा नगर पालिका परिषद् निर्माण करवाना चाहे तो इस संबंध में शासन के क्या-क्या निर्देश है? (घ) उक्त जिलों के किन-किन हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों को विगत 02 वर्षों में विभाग द्वारा कितना फर्नीचर कब-कब उपलबध करवाया? फर्नीचर उपलब्ध करवाने हेतु विद्यालय का चयन का मापदण्ड क्या है? शेष विद्यालयों को कब तक फर्नीचर उपलब्ध करवाया जायेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) भवनविहीन स्कूलों में भवन निर्माण बजट उपलब्धता पर निर्भर करता है। (ख) जिले के सभी हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में शौचालय एवं पेयजल की व्यवस्था उपलब्ध है अत: शेषांश का प्रश्न नहीं उठता। (ग) अतिक्रमण रोकने हेतु राजस्व अधिकारी द्वारा वैधानिक कार्यवाही की जाने का प्रावधान है। विद्यालय की आय बढ़ाने हेतु भूमि पर आय कॉम्पलेक्स निर्माण हेतु प्रस्ताव की विशिष्ट तथ्यों के आधार पर ही नियमानुसार कार्यवाही की जा सकती है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। फर्नीचर प्रदाय बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। अत: समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
रिक्त पदों की पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
110. ( क्र. 2568 ) श्रीमती शकुन्तला खटीक : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) परि.अता.प्रश्न संख्या 83 (क्रमांक 1204), दिनांक 09 दिसम्बर 2016 तारांकित प्रश्नोत्तर भाग (क) व (ख) के समस्यावार जो उत्तर दिया है जी नहीं, शिशुरोग विशेषज्ञ का पद विगत 02 वर्षों से रिक्त है एवं एक्सरे टेक्नीशियन के पद पर श्री रामेश्वर टेकाम, दिनांक 23/02/2016 से पदस्थ होकर कार्यरत है। प्रश्न में उल्लेखित अन्य विशेषज्ञों यथा स्त्रीरोग, निश्चेतना के पद विगत 05 वर्षों से अधिक अवधि से रिक्त हैं। उपरोक्त वर्णित समस्याओं के प्रश्न प्रस्तुत दिनांक तक पूर्ति किये जाने में क्या कार्यवाही की गई व क्या कार्यवाही शेष है? (ख) शेष समस्याएं कब तक पूर्ण कर दी जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) विभाग रिक्त पदों की पूर्ति हेतु निरंतर प्रयास करता है परंतु प्रदेश में विशेषज्ञों/चिकित्सकों की अत्यधिक कमी के कारण तथा विशेषज्ञ के शतप्रतिशत पद पदोन्नति से भरे जाने का प्रावधान होने के कारण, पद पूर्ति में कठिनाई हो रही है। विभाग द्वारा चिकित्सकों के पदों की पूर्ति हेतु 1896 चिकित्सकों की भर्ती के लिये मांग पत्र प्रेषित किया गया था, वर्तमान में साक्षात्कार की कार्यवाही प्रचलन में है, चयन सूची प्राप्त होने पर पदपूर्ति संबंधी कार्यवाही की जा सकेगी। (ख) तारांकित प्रश्न 1204 में विशेषज्ञ के पदों की पूर्ति एवं एक्स-रे टेक्नीशियन की पदपूर्ति के संबंध में लेख किया गया था। एक्स-रे टेक्नीशियन पूर्व से करैरा में पदस्थ है, अतः प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विमुकत, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति कल्याण से संबंधित
[विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति कल्याण]
111. ( क्र. 2569 ) श्रीमती शकुन्तला खटीक : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति कल्याण के जन कल्याणार्थ शासन द्वारा इन्हें क्या-क्या सुविधाएं देने के प्रावधान हैं व क्रियान्वन हेतु क्या नीति/नियम निर्धारित है एवं इस विभागान्तर्गत कौन-कौन जाति शामिल हैं? (ख) प्रश्नांश (क) की जानकारी के अनुसार जिला शिवपुरी म.प्र. को विगत 03 वर्ष में शासन द्वारा कितनी राशि उपलब्ध कराई गई, वर्षवार जानकारी दी जावे? (ग) प्रश्नांश (ख) में प्राप्त राशि से नगर परिषद् करैरा व नरवर तथा जनपद क्षेत्र करैरा व नरवर से संबंधित दी जावे? जानकारी में स्थान का नाम, कार्य विवरण, देयक राशि, मांग संख्या, लेखाशीर्ष, क्रियान्वन एजेंसी, स्वीकृत वर्ष व दिनांक देते हुये कार्य की अद्यतन स्थिति से अवगत करावें?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) विभाग द्वारा विमुक्त घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति वर्ग के कल्याण हेतु छात्रवृत्ति, छात्रावास, विमुक्त जाति आवास अनुदान योजना, विमुक्त जाति बस्ती विकास योजना, आदि मुख्य योजना संचालित है। इन योजनाओं के नियम की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-‘अ’ अनुसार है एवं इस वर्ग में सम्मिलित जातियों का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-‘ब’ अनुसार है। (ख) शिवपुरी जिले में प्रश्नाधीन अवधि में योजनावार उपलब्ध कराई गई राशि का विवरण निम्नानुसार हैः-
क्र. |
वर्ष |
योजना का नाम |
आवंटित राशि |
1 |
2014-15 |
छात्रवृत्ति |
स्कूल शिक्षा विभाग से राशि प्रदाय की जाती है। |
विमुक्त जाति छात्रावास-2 |
रूपये 2.60 लाख |
||
2 |
2015-16 |
छात्रवृत्ति |
स्कूल शिक्षा विभाग से राशि प्रदाय की जाती है। |
विमुक्त जाति छात्रावास-2 |
रूपये 3.50 लाख |
||
3 |
2016-17 |
छात्रवृत्ति |
स्कूल शिक्षा विभाग से राशि प्रदाय की जाती है। |
विमुक्त जाति छात्रावास-2 |
रूपये 3.50 लाख |
(ग) विमुक्त घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति बस्ती विकास योजना में शिवपुरी जिले के नगर परिषद् करैरा व नरवर तथा जनपद क्षेत्र करैरा व नरवर से कोई पूर्ण प्रस्ताव प्राप्त न होने के कारण राशि आवंटित नहीं की गई है। अतः शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अनुसूचित जनजाति वर्ग को आकस्मिक उपचार हेतु आर्थिक सहायता से संबंधित
[आदिम जाति कल्याण]
112. ( क्र. 2570 ) श्रीमती शकुन्तला खटीक : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अनुसूचित जनजाति कल्याण विभाग द्वारा अनुसूचित जनजाति वर्ग के व्यक्तियों को आकास्मिक उपचार हेतु आर्थिक सहायता देने की क्या नीति नियम प्रचलन में हैं? (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में जिला शिवपुरी म.प्र. को जनवरी 2014 से जनवरी 2017 तक कितनी राशि प्राप्त हुई व प्राप्त राशि में से संबंधित वर्ग के कितने हितग्राही/व्यक्तियों को कितनी राहत राशि दी गई? (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में क्या जनप्रतिनिधि व त्रिस्तरीय पंचायतीराज के प्रतिनिधियों द्वारा राशि देने हेतु प्रस्ताव अनुशंसा सहित पत्र प्राप्त हुये थे? यदि हाँ, तो उसकी भी जानकारी उपरोक्त अवधि के अनुसार दी जावें?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) प्रश्नांश अंतर्गत रू. 146156/- का आवंटन प्राप्त हुआ है। जिसमें से 220 हितग्राही को रूपये 364500/- की राशि प्रदान की गई। (ग) जानकारी निम्नानुसार है-
क्र. |
मान. जन प्रतिनिधियों का नाम |
प्राप्त आवेदनों की संख्या |
1 |
मान. सांसद महो. |
22 |
2 |
सहरिया क्रांति संगठन शिवपुरी |
02 |
3 |
एकता परिषद इकाई शिवपुरी |
05 |
4 |
मान. विधायक पिछौर |
01 |
5 |
मान. विधायक करेरा |
04 |
विधान सभा क्षेत्र केवलारी में डॉक्टरों की भर्ती
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
113. ( क्र. 2657 ) श्री रजनीश सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधान सभा क्षेत्र केवलारी में डॉक्टरों की अत्यंत कमी है तथा सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र छपारा में शासन से निर्धारित पदों के अनुसार डॉक्टर एवं महिला डॉक्टर नहीं है? जिसके कारण ग्रामीण क्षेत्रों के आम लोगों को इलाज के दौरान काफी परेशानी उठानी पड़ रही है। क्या छपारा एवं केवलारी में एक-एक महिला डॉक्टर एवं एक-एक पुरूष डॉक्टरों की पद स्थापना करेंगे। यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो कारण स्पष्ट करें। (ख) क्या छपारा अस्पताल में महिला डॉक्टर ना होने के कारण महिलाओं के मृत शरीर का पी.एम. होने तक की परेशानी आ जाती है? क्या छपारा में महिला डॉक्टर तैनात करेंगे। यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो कारण स्पष्ट करें। (ग) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र छपारा में कितने डॉ. व अन्य स्टाफ कार्यरत है? क्या छपारा में अन्य स्टाफ की अत्यधिक कमी है? यदि हाँ, तो इसे कब तक पूर्ण कर लिया जावेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ, विधानसभा क्षेत्र केवलारी अंतर्गत प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र स्तर की संस्थाओं में चिकित्सकों की कमी है, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र स्तर की संस्थाओं में पद स्वीकृति के मान से चिकित्सा अधिकारी पदस्थ है। प्रदेश में विशेषज्ञों की अत्यधिक कमी के कारण विशेषज्ञों पदस्थापना नहीं की जा सकी है। केवलारी में चिकित्सा अधिकारी के 03 पद स्वीकृत है तथा 01 नियमित चिकित्सक एवं 02 चिकित्सक डॉ. अमृत लकरा एवं डॉ. ग्लोरिया लकरा, चिकित्सा अधिकारी स्थानीय स्तर पर सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, केवलारी में सेवायें दे रहे हैं। अतः स्वीकृत 03 पदों के विरूद्ध 03 चिकित्सक सेवायें दे रहे हैं। पदपूर्ति हेतु विभाग निरंतर कार्यवाही कर रहा है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी नहीं, जून 2016 से एक महिला चिकित्सक डॉ. नेहा पटेरिया, चिकित्सा अधिकारी कार्यरत थी हाल ही में विवाह होने के कारण इनका स्थानांतरण छतरपुर किया गया है। रिक्त पदों की पूर्ति हेतु मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग में 1896 पदों हेतु साक्षात्कार प्रक्रिया प्रचलन में है। स्त्रीरोग योग्तयाधारी/महिला चिकित्सक की उपलब्धता अनुसार पदस्थापना की कार्यवाही की जा सकेगी, निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। जी नहीं, पर्याप्त मात्रा में स्टॉफ उपलब्ध है एवं आवश्यक स्वास्थ्य सुविधाएं प्रदान कर रहा है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विद्यार्थियों को कक्ष की उपलब्धता
[स्कूल शिक्षा]
114. ( क्र. 2658 ) श्री रजनीश सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र केवलारी में शासकीय स्कूलों में हायर सेकेण्डरी एवं हाई स्कूल में कितने विद्यार्थी अध्ययनरत है? स्कूलवार बतायें? (ख) अध्ययनरत विद्यार्थियों को शासन के नियमानुसार कितने कक्ष आवश्यक है? (ग) विद्यार्थियों को संस्थावार कितने कक्ष उपलब्ध है? यदि कमी है तो विवरण दें। (घ) दो पालियों में संचालित विद्यालयों के नाम व समय-सारणी बतावें। क्या अतिरिक्त कक्ष निर्माण हेतु विभाग के समक्ष कोई प्रस्ताव विचाराधीन है? क्या आगामी वर्ष में विधानसभा क्षेत्र में और भी अतिरिक्त कक्ष का निर्माण होना है? यदि हाँ, तो कहाँ-कहाँ?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) से (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) सभी हाईस्कूल एवं हायरसेकेण्डरी विद्यालय एक पाली में सुबह 10.30 से 4.30 तक संचालित हो रहे है। अतिरिक्त कक्ष निर्माण बजट उपलब्धता पर निर्भर करता है।
आदिवासी उपयोजना मद में विभाग को प्राप्त राशि
[स्कूल शिक्षा]
115. ( क्र. 2674 ) श्री संजय उइके : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या आदिवासी उपयोजना मद में विभाग को बजट/राशि प्राप्त होती है? (ख) यदि हाँ, तो वित्तीय वर्ष 2013-14 से प्रश्न दिनाँक तक योजनावार, मदवार बालाघाट जिले को कितनी राशि आवंटित की गई है तथा कितनी राशि व्यय की गई है? (ग) आदिवासी उपयोजना मद की प्राप्त राशि के व्यय/आवंटन करने का आधार/मापदण्ड क्या है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) प्राथमिक एवं माध्यमिक स्तर के योजनाओं के लिए जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 तथा हाई/हायर सेकेण्डरी शालाओं की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-2 पर है। (ग) योजनाओं में प्रावधान अनुसार एवं समय-समय पर जारी दिशा-निर्देशों अनुसार राशि आवंटित की जाती है।
आदिवासी उपयोजना मद में विभाग को प्राप्त राशि
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
116. ( क्र. 2675 ) श्री संजय उइके : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या आदिवासी उपयोजना मद में विभाग को बजट/राशि प्राप्त होती है? (ख) यदि हाँ, तो वित्तीय वर्ष 2013-14 से प्रश्न दिनांक तक योजनावार/मदवार प्रत्येक जिले को कितनी-कितनी राशि आवंटित की गई एवं कितनी-कितनी राशि व्यय की गई? (ग) आदिवासी उपयोजना मद की प्राप्त राशि के व्यय/आवंटन करने का आधार/मापदण्ड क्या हैं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) विभागीय मापदण्ड अनुसार राशि आवंटित की जाती है।
शाला भवन निर्माण एवं विषय विशेषज्ञ की पूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
117. ( क्र. 2684 ) श्री भंवर सिंह शेखावत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र बदनावर अंतर्गत भवन विहिन शासकीय उ.मा. विद्यालय ग्राम काछीबडोदा, खाचरौदा तथा तिलगारा के अतिरिक्त विधानसभा क्षेत्र में कितने और भवन विहिन शासकीय प्राथमिक, माद्यमिक, तथा उ.मा. विद्यालय संचालित हैं? (ख) इनके लिए कब तक भवन स्वीकृत होंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) विधानसभा क्षेत्र बदनावर जिला धार अंतर्गत शासकीय उ.मा. विद्यालय काछी बाडौदा, खाचरौदा तथा तिलगारा के अतिरिक्त कोई शासकीय विद्यालय भवन विहीन नहीं है। (ख) शासकीय उ.मा.वि. शाला भवनों के निर्माण की स्वीकृति बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
शाला भवन का नवीन निर्माण कार्य
[स्कूल शिक्षा]
118. ( क्र. 2685 ) श्री भंवर सिंह शेखावत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधान सभा क्षेत्र बदनावर अंतर्गत कितने शाला भवन जीर्ण-शीर्ण अवस्था में होकर डिसमेंटल योग्य है? (ख) उक्त जीर्ण-शीर्ण भवनों को कब तक डिसमेंटल कर उनके स्थान पर नवीन शाला भवन का निर्माण कर लिया जावेगा? ग्रामवार शालावार जानकारी प्रदान करें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) उक्त जीर्ण-शीर्ण शासकीय प्राथमिक शाला भवनों को डिसमेंटल करने हेतु लोक निर्माण विभाग को लिखा गया है तथा वार्षिक कार्ययोजना 2017-18 में जीर्ण-शीर्ण शाला भवनों के विरूद्ध नवीन भवन निर्माण की स्वीकृति का प्रस्ताव शामिल किया गया है। भारत शासन से स्वीकृति प्राप्त होने पर भवन निर्माण कराया जा सकेगा। समय-सीमा बताना संभव नहीं है। शेषांश जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
शासकीय
चिकित्सालयों
में सफाई तथा
सुरक्षा व्यवस्था
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
119. ( क्र. 2705 ) सुश्री हिना लिखीराम कावरे : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बालाघाट जिले के विभिन्न शासकीय चिकित्सालयों में सतत् गुणवत्तापूर्ण साफ-सफाई की व्यवस्था हेतु सिविल हाँस्पिटल्स, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रों तथा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों में कितने सफाई-कर्मी कितने सुपरवाईजर तथा कितने सुरक्षाकर्मी रखे गये है? चिकित्सालयों अनुसार नाम सहित जानकारी दें? (ख) उक्त कर्मचारियों को कितना मासिक वेतन दिया जा रहा है? (ग) कर्मचारियों के ई.पी.एफ. नम्बर (EPF) तथा नियोक्ता तथा कर्मचारियों का प्रतिमाह कटने वाला अंश के संबंध में जानकारी दें। (घ) क्या वर्तमान में टेण्डर में दिये गये संख्यानुसार कर्मचारी चिकित्सालयों में कार्यरत है? उक्त कार्य को करने के लिए ईगल सेक्युरिटी सर्विस एंड लेबर सप्लायर भोपाल के पास कौन से दस्तावेज हैं? यदि हाँ, तो उपलब्ध कराएं?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। (ख) आउट र्सोस ऐजेन्सी द्वारा कर्मचारियों को किये जा रहे भुगतान की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। कर्मचारी का अंश मासिक मानदेय का 12 प्रतिशत एवं नियोक्ता का अंश 13.36 प्रतिशत है। (घ) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’ब’’ अनुसार है।
विभाग की योजनाओं का क्रियान्वयन
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
120. ( क्र. 2706 ) सुश्री हिना लिखीराम कावरे : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि छात्रवृत्ति योजना को छोड़कर बालाघाट जिले में विगत तीन वर्षों में विभाग की किन-किन योजनाओं का लाभ कितने लोगों को दिया गया? वर्षवार जानकारी दें।
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
शासकीय राशि का दुरूपयोग
[स्कूल शिक्षा]
121. ( क्र. 2716 ) श्रीमती ऊषा चौधरी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सिंगरौली जिले के विकासखंड देवसर के अंतर्गत शा.उ.मा.वि. में पदस्थ प्राचार्य द्वारा वर्ष 2015 में उप कोषालय देवसर से रूपये 120000/- विद्यालय के रख-रखाव हेतु आहरित की गई थी, जिस राशि को प्राचार्य द्वारा अपने निजी खाता में जमा कर स्वयं के उपयोग में लगाया गया था? (ख) क्या प्राचार्य द्वारा गुरूजियों को बिना शासन के आदेश के बावजूद भी लगभग 30 गुरुजियों को एरियर्स का भुगतान लगभग 42 लाख रुपये की गई थी? यदि की गई थी तो किस नियम के तहत क्या अध्यनरत कक्षा 9 एवं 12वीं के छात्रों से 45 रूपये के स्थान पर 100 रूपये परीक्षा शुल्क वसूल की गई थी तथा एस.एम.डी.सी. मद से विगत दो वर्ष पूर्व बने भवन के फर्श को भी मरम्मत कार्य दिखाकर लाखों रूपये की राशि निकाल ली गई है? (ग) क्या प्रश्नांश (क) एवं (ख) के संबंध में प्राचार्य के विरूद्ध की गई शिकायतों की जाँच कराकर राशि वसूली करते हुए अनुशासनात्मक कार्यवाही की जावेगी? (घ) क्या शा.उ.मा.वि. बरका में पदस्थ प्राचार्य हाई स्कूल स्तर के हैं जिनकी पदस्थापना लोक शिक्षण संचालनालय भोपाल से की गई है, यदि नहीं, तो किसके द्वारा की गई है? क्या उक्त विद्यालय में पदस्थ प्राचार्य एल.के. पाण्डेय द्वारा कंप्यूटर के एज्यूकेशन पोर्टल में छेड़-छाड़ कर अपना नाम उक्त विद्यालय के प्राचार्य पद पर दर्ज करा लिया है? क्या इसकी सूक्ष्म परीक्षण कराकर अनुशासनात्मक कार्यवाही की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) गुरूजी संवर्ग के एरियर्स की राशि के भुगतान के संबंध में जाँच कराई जायेगी। शैक्षणिक सत्र 2016-17 में कक्षा 9वीं से 12वीं तक अध्ययनरत् छात्रों से वार्षिक शुल्क ली गई है। परीक्षा मद की समस्त राशि परीक्षा विभाग के खाते में यू.बी.आई. नगरीय निवास में जमा है। एस.एम.डी.सी. की बैठक कर 04 वर्ष पुराने भवन का मरम्मत कराया गया है। (ग) प्राचार्य को कारण बताओ सूचना पत्र जारी किया गया है। प्रतिवाद प्राप्त होने के पश्चात गुण-दोष के आधार पर निर्णय लिया जायेगा। (घ) इस विषय पर जाँच कराई जायेगी। जाँच प्रतिवेदन प्राप्त होने पर नियमानुसार कार्यवाही की जा सकेगी।
विमुक्त घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ बस्ती में विकास
[विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्धघुमक्कड़ जाति कल्याण]
122. ( क्र. 2727 ) श्री इन्दर सिंह परमार : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) शुजालपुर एवं कालापीपल विकासखंड में अनुसूचित जनजाति घुमक्कड़/अर्द्ध घुमक्कड़ जातियों के लोग किन-किन गाँवो में कितनी-कितनी संख्या में निवास करते है? विकासखंडवार जानकारी देवें। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित बस्तियों/गाँवो में प्रश्न दिनांक तक कौन-कौन से विकास कार्य करवाए गए। (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित बस्तियों/गाँवो के विकास हेतु क्या कोई विकास की योजनाए बनाई गई है? यदि हाँ, तो गाँववार जानकारी देवें।
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) शुजालपुर एवं कालापीपल विकासखण्ड में अनुसूचित जनजाति घुमक्कड़/अर्द्ध घुमक्कड़ जातियों के 12735 लोग निवास करते हैं। ग्रामवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित बस्तियों में जनपद पंचायतों द्वारा प्रश्न दिनांक तक कराये गये विकास कार्यों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। (ग) जी हाँ। प्रश्नांश (क) में उल्लेखित बस्तियों/ग्रामों के विकास हेतु जनपद पंचायत द्वारा विकास योजना बनाई गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है।
पुराने अस्पताल भवन की मरम्मत एवं अतिक्रमण मुक्त करना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
123. ( क्र. 2745 ) श्री नारायण सिंह पँवार : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के अता. प्रश्न (क्रमांक 3885) दिनांक 4 मार्च 2016 के उत्तर की कंडिका (ख) में बताया गया था कि पुराने अस्पताल भवन के मरम्मत योग्य हिस्से को आवश्यकता अनुसार स्वीकृति उपरान्त मरम्मत की कार्यवाही की जावेगी। अतिक्रमण मुक्त के संबंध में कार्यवाही प्रचलन में है? यदि हाँ, तो क्या प्रश्न दिनांक मरम्मत कार्य कराया गया? यदि हाँ, तो उक्त भवन में क्या-क्या मरम्मत कार्य करवाये गये? क्या उक्त भवन एवं परिसर को प्रश्न दिनांक तक अतिक्रमण मुक्त करा दिया गया है? यदि नहीं, तो क्यों? (ख) क्या शासन उक्त पुराने अस्पताल भवन के मरम्मत योग्य हिस्से की मरम्मत एवं अतिक्रमण मुक्त कराने की कार्यवाही करेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। जी हाँ। जी हाँ। पुराने अस्पताल भवन में खिड़की दरवाजे रिपेयरिंग, एल्यूमिनियम एवं स्टील वर्क, भवन की पुताई विद्युत कनेक्शन एवं नल कनेक्शन का कार्य कराया गया है। जी हाँ, अतः शेष का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में शेष का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
स्कूल में सड़क, पानी, बिजली एवं सुरक्षा की व्यवस्था
[स्कूल शिक्षा]
124. ( क्र. 2751 ) श्री अमर सिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजगढ़ जिले में मॉडल स्कूल कहाँ कहाँ पर तथा कब कब स्वीकृत किये गये है? (ख) क्या उक्त स्वीकृत मॉडल स्कूलों के भवन भी बनकर तैयार हो गये हैं तथा उसमें स्कूल लगना प्रारम्भ हो गये हैं? (ग) यदि हाँ, तो राजगढ़ विधानसभा क्षेत्र के नगर खुजनेर के मॉडल स्कूल में सड़क, पानी, बिजली एवं स्कूल की सुरक्षा की व्यवस्था है? (घ) यदि नहीं, तो राजगढ़ विधानसभा क्षेत्र के नगर खुजनेर के मॉडल स्कूल में सड़क, पानी, बिजली एवं स्कूल की सुरक्षा की व्यवस्था हेतु बाउण्ड्रीवॉल का निर्माण कब तक किया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) राजगढ़ जिले में 06 मॉडल स्कूल स्वीकृत है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ, राजगढ़ जिले के सभी मॉडल स्कूल भवन बनकर तैयार हो गये हैं। नरसिंहगढ़, ब्यावरा, सारंगपुर, खिलचीपुर, जीरापुर में मॉडल स्कूलों में कक्षाएं संचालित की जा रही है। मॉडल स्कूल खुजनेर में अभी कक्षाएं संचालित नहीं की जा रही है। (ग) जी हाँ, मॉडल स्कूल खुजनेर में आंतरिक विद्युतीकरण, पेय-जल के कार्य पूर्ण हो चुके हैं। पहुँच मार्ग का कार्य मॉडल स्कूल भवन के साथ स्वीकृत नहीं किया गया है। भवन आदि की सुरक्षा व्यवस्था हेतु लोकल निधि से 02 चैकीदारों की व्यवस्था की गई है। (घ) बाउण्ड्रीवॉल का निर्माण बजट उपलब्धता पर निर्भर करेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
जिला चिकित्सालय तथा अन्य चिकित्सालयों में पदों की पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
125. ( क्र. 2752 ) श्री अमर सिंह यादव : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजगढ़ जिले के जिला चिकित्सालय तथा अन्य चिकित्सालयों में किस-किस श्रेणी के कौन-कौन से पद स्वीकत हैं? सभी पदों की जानकारी पदवार चिकित्सालयवार बतावें l (ख) राजगढ़ जिले के जिला चिकित्सालय तथा अन्य चिकित्सालयों में किस-किस श्रेणी के कौन-कौन से पद कब से तथा किस कारण से रिक्त हैं? सभी पदों की जानकारी पदवार चिकित्सालयवार बतावें l (ग) उक्त स्वीकृत पदों के इतने दिनों से रिक्त रहने से क्या चिकित्सालयों में परेशानी नहीं हो रही है? रिक्त रहने का क्या कारण है? पदवार चिकित्सालयवार बतावें l (घ) जनहित में जनता को अच्छी चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराये जाने हेतु उक्त स्वीकृत रिक्त पदों की पूर्ति कब तक कर दी जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। संस्था के उन्नयन उपरांत नवीन स्वीकृत पद पर प्रदेश में चिकित्सकों एवं विशेषज्ञ संवर्ग में चिकित्सकों की कमी तथा पदोन्नति नियम शून्य होने एवं कर्मचारियों के सेवानिवृत होने के कारण पद रिक्त है। (ग) जी नहीं, उपलब्ध मानव संसाधन से स्वास्थ्य सुविधायें उपलब्ध कराई जा रही है। जानकारी उत्तरांश (ख) अनुसार है। (घ) विभाग के अधीन सीधी भर्ती के रिक्त पदों पर लोक सेवा आयोग एवं प्रोफेशनल एक्जामिनेशन बोर्ड के माध्यम से पद पूर्ति की कार्यवाही निरंतर जारी है। निश्चित समय-सीमा बताई जाना संभव नहीं है।
छात्रावास की स्वीकृति
[अनुसूचित जाति कल्याण]
126. ( क्र. 2789 ) श्री गोविन्द सिंह पटेल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नरसिंहपुर जिले के गाडरवारा विधान सभा क्षेत्र में आदिम जाति कल्याण विभाग द्वारा छात्र-छात्राओं हेतु कितने छात्रावास स्वीकृत हैं तथा कितनों के पास अपने भवन हैं एवं कितने भवनविहिन हैं तथा भवनविहिन छात्रावासों में कब तक भवन निर्माण किये जा सकेंगे? बताने का कष्ट करें। (ख) क्या विभाग द्वारा अन्य और भी स्थानों पर नवीन छात्रावास खोलने हेतु विभाग की कोई योजना है? स्थानवार जानकारी देवें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) नरसिंहपुर जिले के गाडरवारा विधानसभा क्षेत्र में अनुसूचित जाति के 10 एवं अनुसूचित जनजाति के 05 छात्रावास संचालित हैं। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। अनुसूचित जाति के 08 छात्रावास विभागीय भवन में एवं 02 छात्रावास किराये के भवन में संचालित हैं। 02 भवन विहीन छात्रावासों की भवन निर्माण हेतु समय-सीमा बताना संभव नहीं है। (ख) विभाग अंतर्गत आगामी वित्तीय वर्ष में नवीन छात्रावास खोले जाने की अभी कोई योजना नहीं है।
स्कूलों का उन्नयन एवं रिक्त पदों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
127. ( क्र. 2790 ) श्री गोविन्द सिंह पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नरसिंहपुर जिले के गाडरवारा विधानसभा में कितनी दूरी एवं कितनी छात्र संख्या के अनुसार प्राथमिक, हाईस्कूल एवं हाई सेकेण्डरी स्कूल खोलने हेतु विभाग की योजना है या उन्नयन करने का प्रावधान है? (ख) प्रश्नांश (क) अंतर्गत वर्तमान में ऐसे कितने ग्राम है, जहां उक्त मापदण्ड के अनुसार प्राथमिक, हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल खोलने की आवश्यकता है एवं कितनी ऐसी शालायें है, जिनका उन्नयन होना आवश्यक है? शालावार जानकारी देवें। (ग) गाडरवारा विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत ऐसे कितने हायर सेकेण्डरी स्कूल है, जिनमें प्राचार्य नहीं है? प्राचार्य की पदस्थापना कब तक कर दी जायेगी? (घ) विकासखण्ड सांईखेड़ा के अंतर्गत हायर सेकेण्डरी स्कूल नांदनेर में प्राचार्य तथा शिक्षकों एवं भृत्य, चौकीदार आदि के पद रिक्त हैं, इनकी पूर्ति कब तक कर दी जायेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) शासकीय प्राथमिक विद्यालय से माध्यमिक विद्यालय के संबंध में उन्नयन हेतु निःशुल्क और अनिवार्य बाल शिक्षा अधिकार अधिनियम 2009 अंतर्गत निःशुल्क और अनिवार्य बाल शिक्षा अधिकार नियम 26 मार्च 2011 की धारा-4 में पड़ोस के तहत-‘‘(1) क्षेत्र या पड़ोस की सीमाएं जिनके भीतर राज्य सरकार द्वारा स्कूल स्थापित किया जाना है नियम 2 के उपनियम (1) के खण्ड (ट) में यथा परिभाषित क्षेत्र या सीमा होगी परंतु यदि क्षेत्र के भीतर किसी बसाहट या पड़ोस की सीमा में एक कि.मी. की परिधि के भीतर प्रायमरी स्कूल की सुविधा नहीं है और 6 से 11 वर्ष की आयु के कम से कम 40 बच्चे उपलब्ध है, तो राज्य सरकार ऐसी बसाहट में प्रायमरी स्कूल की सुविधा उपबंध करेगी परंतु यह और कि यदि क्षेत्र के भीतर बसाहट या पड़ोस की सीमा के भीतर तीन कि.मी. की परिधि में कोई मिडिल स्कूल की सुविधा उपलब्ध नहीं है और 11 से 14 वर्ष की आयु के कम से कम 12 बच्चे उपलब्ध है, तो राज्य सरकार ऐसी बसाहट में मिडिल स्कूल की सुविधा उपबंध करेगी।‘‘ शासकीय माध्यमिक विद्यालय से हाई स्कूल, हाई स्कूल से हायर सेकेण्डरी स्कूल उन्नयन हेतु निर्धारित मापदण्ड संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) गाडरवारा विधानसभा क्षेत्र के समस्त ग्रामों में प्राथमिक शिक्षा की सुविधा उपलब्ध है एवं वर्ष 2016-17 में न.मा.शा. चांदनखेडा हाई स्कूल में एवं शासकीय हाई स्कूल डुंगरिया हायर सेकेण्डरी स्कूल में उन्नयन हेतु पात्र है। (ग) शा.क.उ.मा.वि. सालेचैका, शा.क.उ.मा.वि. तेन्दूखेडा (गोटी टोरिया) एवं शा.उ.मा.वि. नांदनेर में प्राचार्य का पद रिक्त हैं। पदपूर्ति एक सतत् प्रक्रिया है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (घ) पदपूर्ति एक सतत् प्रक्रिया है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन का क्रियान्वयन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
128. ( क्र. 2793 ) श्री दिनेश राय (मुनमुन) : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन अंतर्गत कार्यरत कर्मचारियों के पद समाप्त किए गए हैं? यदि हाँ, तो सिवनी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत किन-किन पदों को समाप्त किया गया है? क्या विभाग द्वारा पद समाप्त किए जाने से आमजन को होने वाली समस्याओं के समाधान के लिये कोई वैकल्पिक व्यवस्था की गई है? (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में सिवनी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत समाप्त किए गए पदों के कर्मचारी कब से पदस्थ थे तथा इनकी पदस्थापना किस नियम से तथा कैसे की गई थी? पद समाप्ति से प्रभावित कर्मचारियों के संबंध में शासन ने क्या व्यवस्था की है? (ग) क्या स्वास्थ्य विभाग में स्वीकृत पद के विरूद्ध कम कर्मचारी कार्यरत हैं? यदि हाँ, तो क्या राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन अंतर्गत कार्यरत कर्मचारी जिनके पद समाप्त किए गए हैं, उनकी योग्यता व अनुभव के आधार पर उन्हें रिक्त पद पर नियुक्ति प्रदान की जावेगी? क्या शासन द्वारा इस संबंध में कोई कार्ययोजना बनाई जा रही है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। किशोर स्वास्थ्य परामर्शदाता, मलेरिया एकाउन्टेंट, बीमॉक लेखापाल, स्तनपान सलाहकार एवं सोशल मोबिलाईजर के पद समाप्त किये गए हैं। जी हाँ। (ख) किशोर स्वास्थ्य परामर्शदाता 14.08.2013 से एवं मलेरिया एकाउन्टेंट 26.02.2013 से बीमॉक लेखापाल दिसंबर 2007 से स्तनपान सलाहकार 12.08.2011 से एवं सोशल मोबिलाईजर 17.06.2013 से पदस्थ थे। इनकी पदस्थापना तत्समय राष्ट्रीय ग्रामीण स्वास्थ्य मिशन के प्रचलित भर्ती नियमों व प्रक्रिया के अंतर्गत की गई थी। मलेरिया अकाउंटेंट, बीमॉक लेखापाल, स्तनपान सलाहकार एवं सोशल मोबिलाईजर का समायोजन अन्य रिक्त पद पर किया गया है। (ग) जी हाँ। जी नहीं। जी नहीं।
सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्रो में एक्स-रे मशीन की स्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
129. ( क्र. 2794 ) श्री दिनेश राय (मुनमुन) : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सिवनी विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र गोपालगंज, बंडोल, बखारी व चमारी में एक्स-रे मशीन की सुविधा इस सभी स्वास्थ्य केन्द्रों पर नहीं है, जिससे मरीजों को कठिनाई का सामना करना पड़ता है, ऐसी स्थिति में मरीजों की सुविधा को ध्यान में रखते हुये एक्स-रे मशीने गोपालगंज, बंडोल, बखारी व चमारी में लगवायेंगे? (ख) क्या कभी-कभी गंभीर दुर्घटना हो जाने पर एक्स-रे मशीन न होने के कारण मरीज को बाहर जाकर इलाज के लिये रिफर कर दिया जाता है? (ग) ऐसी विषम परिस्थितियों को भी ध्यान में रखते हुये तथा आम जनता के स्वास्थ्य की चिन्ता करते हुये क्या एक्स-रे मशीन लगाये जाने की व्यवस्था करेंगे? यदि हाँ, तो कब तक आदेश जारी कर दिये जायेंगे? यदि नहीं, तो क्यों?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी नहीं। सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र गोपालगंज में एक्स-रे की सुविधा उपलब्ध है। जी नहीं, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों पर एक्स-रे की सुविधा उपलब्ध कराने का प्रावधान नहीं है। (ख) जी हाँ। (ग) जी नहीं। निर्धारित मापदण्ड के अनुरूप नहीं होने के कारण।
उप-स्वास्थ्य केन्द्रों का उन्नयन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
130. ( क्र. 2803 ) श्री अरूण भीमावद : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शाजापुर विधानसभा क्षेत्र में कितने उप-स्वास्थ्य केन्द्र संचालित हैं? इनके उन्नयन हेतु शासन के क्या मापदण्ड हैं? (ख) पनवाड़ी कस्बे में जनगणना 2011 के अनुसार जनसंख्या 5 हजार के लगभग है तथा इसके आस-पास के क्षेत्रों को मिलाने पर जनसंख्या 30 हजार के ऊपर होगी? (ग) क्या क्षेत्र का सबसे बड़ा कस्बा पनवाड़ी उप-स्वास्थ्य केन्द्र उन्नयन हेतु शासन के सभी मापदण्डों को पूरा भी करता है? गंभीर बीमारी/स्त्री प्रसव हेतु जिला चिकित्सालय या अन्यत्र के जाना पड़ता है? (घ) यदि हाँ, तो उक्त समस्या के समाधान हेतु शासन मापदण्डों की पूर्ति करने के पश्चात उन्नयन का कार्य बजट में शामिल करेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) शाजापुर विधान सभा क्षेत्र 28 उप-स्वास्थ्य केन्द्र संचालित है। सामान्य क्षेत्रों में उप-स्वास्थ्य केन्द्र क्षेत्र की कुल जनसंख्या 30 हजार होने पर उप-स्वास्थ्य केन्द्र का प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में उन्नयन करने का प्रावधान है। (ख) जी हाँ। (ग) जी हाँ। जी हाँ। (घ) मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी से प्रस्ताव प्राप्त कर नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी।
स्वीकृत नवीन कार्य
[अनुसूचित जाति कल्याण]
131. ( क्र. 2841 ) श्री विष्णु खत्री : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बैरसिया विधानसभा क्षेत्रांतर्गत माह जनवरी 2014 से दिसम्बर 2016 के मध्य आदिम जाति कल्याण एवं अनुसूचित जाति कल्याण विभाग द्वारा कौन-कौन से नवीन विकास/निर्माण कार्य स्वीकृत हुये? ग्रामवार लागत सहित सूची उपलब्ध करावें? (ख) प्रश्नांश (क) में दर्शित नवीन स्वीकृत विकास/निर्माण कार्य में से कितने कार्य पूर्ण होकर क्षेत्रीयजनों को उसका लाभ मिलने लगा है शेष लंबित कार्य कब तक पूर्ण कर लिये जावेंगे? सूची उपलब्ध करावें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) विधानसभा क्षेत्र बैरसिया अंतर्गत माह जनवरी 2014 से दिसम्बर, 2016 के मध्य निर्माण कार्यों की ग्रामवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। (ख) 56 कार्य पूर्ण होकर निवासरत क्षेत्रीयजनों को उसका लाभ मिलने लगा है। शेष 15 कार्य प्रगति पर हैं, जिन्हें 31 मई तक पूर्ण किया जावेगा। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है।
स्वीकृत नवीन कार्यों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
132. ( क्र. 2842 ) श्री विष्णु खत्री : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बैरसिया विधानसभा क्षेत्रांतर्गत माह जनवरी 2014 से दिसम्बर 2016 के मध्य विभाग द्वारा कौन-कौन से नवीन विकास/निर्माण कार्य/शालायें स्वीकृत हुयी हैं? ग्रामवार लागत सहित विस्तृत सूची उपलब्ध करावें? (ख) प्रश्नांश (क) में दर्शित नवीन स्वीकृत कार्य में से कितने कार्य पूर्ण होकर क्षेत्रीयजनों को उसका लाभ मिलने लगा है, शेष लंबित कार्य कब तक पूर्ण कर लिये जावेगें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) हाई व हायर सेकेण्डरी तथा प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों से संबंधित जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-'अ' एवं 'ब' अनुसार है। (ख) हाई व हायर सेकेण्डरी तथा प्राथमिक व माध्यमिक विद्यालयों से संबंधित जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-'अ' एवं 'ब' अनुसार है। निर्माणाधीन कार्य पूर्ण होने पर उनका लाभ मिलने लगेगा। निर्माणाधीन भवनों में कार्य प्रगति पर है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
विभागीय योजनाओं का क्रियान्वयन
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
133. ( क्र. 2860 ) श्री संदीप श्री प्रसाद जायसवाल : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) कौशल विकास प्रशिक्षण योजना के तहत वर्ष 2014-15 से कटनी जिले में कितने व्यक्तियों को, किन-किन विषयों पर कौन-कौन संस्थाओं द्वारा प्रशिक्षण दिया गया? प्रशिक्षणार्थियों के नाम, पिता का नाम, पता सहित सूची दें? (ख) प्रश्नांश ''क'' प्रशिक्षण प्रदान करने वाली संस्थाओं के पास, उपलब्ध संसाधनों, प्रशिक्षकों के नाम, योग्यता एवं प्रशिक्षण केन्द्रों के पतों की जानकारी बतायें एवं बताये कि प्रशिक्षण अवधि में किन-किन शासकीय सेवकों द्वारा कब-कब निरीक्षण किया गया? निरीक्षण प्रतिवेदन उपलब्ध करायें। (ग) प्रश्नांश (क) क्या प्रशिक्षणार्थियों का प्लेसमेंट किया गया? यदि हाँ, तो किस-किस प्रशिक्षणार्थियों का कब-कब एवं कहाँ-कहाँ प्लेसमेंट किया गया? प्रशिक्षणार्थीवार बतायें। यदि नहीं, तो क्यों? इस पर क्या कार्यवाही की गई? बतायें। (घ) प्रश्नांश ''ग'' प्लेसमेंट कार्यवाही के सत्यापन के क्या शासनादेश/निर्देश हैं? प्लेसमेंट की कार्यवाही का सत्यापन किस प्रकार एवं कब-कब, किन-किन के द्वारा किया गया? (ड.) सामान्य प्रशासन विभाग मध्यप्रदेश शासन के आदेश दिनांक 04/02/2016 के पालन में कटनी जिले में विभागीय योजनाओं के कार्यों के बाहरी मूल्यांकन की रिपोर्ट/प्रतिवेदन क्या है?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। (ग) जी हाँ। प्रशिक्षण संस्थाओं द्वारा दिये गये प्लेसमेंट की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार है। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) योजना नियमों में प्लेसमेंट के सत्यापन के लिए पृथक से दिशा-निर्देश नहीं है। वर्ष 2014-2015 प्रशिक्षण कार्य का निरीक्षण विभाग के जिला स्तरीय अधिकारियों से कराया है एवं प्लेसमेंट के संबंध में प्रशिक्षण दाता संस्थाओं के प्रमुख एवं प्रशिक्षणार्थियों से शपथ-पत्र लिये गये हैं। (ड.) विभागीय योजनाओं का मूल्यांकन करने हेतु राज्य योजना आयोग को प्रस्ताव भेजा जा रहा है। उक्त कार्यवाही अभी प्रचलन में है।
विभागीय कार्यों की जानकारी
[आदिम जाति कल्याण]
134. ( क्र. 2861 ) श्री संदीप श्री प्रसाद जायसवाल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2014-15 से प्रश्न दिनांक तक कार्यालय कलेक्टर (आदिम जाति कल्याण) कटनी को कितना बजट/राशि किस मद में, किस कार्य हेतु, प्रति तिमाही/वर्ष मिला? प्राप्त राशि का उपयोग किस-किस कार्य हेतु एवं किस स्थान पर, कब-कब किया गया और कितना बजट/राशि किन कारणों से कब-कब लैप्स हुई? (ख) मुडवारा विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत वर्ष 2014-15 से बस्ती विकास एवं संविधान के अनुच्छेद- 275 (1) मद अंतर्गत निर्माण के कौन-कौन से कार्य, कितनी-कितनी लागत से कहाँ-कहाँ एवं कब-कब कराये गये और विशेष केन्द्रीय सहायता मद अंतर्गत कितने हितग्राहियों को क्या-क्या सामग्री प्रदाय की गई? प्रदाय सामग्री का सत्यापन किस-किस शासकीय सेवक द्वारा किया गया? (ग) कटनी जिले के विभागीय छात्रावासों/आश्रमों में वर्ष 2014-15 से सुधार/मरम्मत/निर्माण के क्या-क्या कार्य, कितनी-कितनी लागत से कब-कब कराये गये? कार्यों के कार्यादेश एवं कार्यपूर्णता प्रमाण-पत्र उपलब्ध करायें।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। कोई राशि लैप्स नहीं हुई है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' तथा कार्योंदेश एवं कार्यपूर्णता प्रमाण-पत्र पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' अनुसार है।
स्कूल भवनों के संबंध में
[स्कूल शिक्षा]
135. ( क्र. 2871 ) श्री पुष्पेन्द्र नाथ पाठक : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र बिजावर में कितने हायर सेकेण्डरी स्कूल संचालित है? (ख) प्रश्नांश (क) के अनुक्रम में उक्त हायर सेकेण्डरी में कितने ऐसे हैं, जो मिडिल से क्रमशः हायर सेकेण्डरी में उन्नयित हुए हैं। (ग) प्रश्नांश (ख) के अनुक्रम में उक्त स्कूल के उन्नयन उपरांत कहाँ–कहाँ भवन स्वीकृत किए गए हैं? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) विधान सभा क्षेत्र बिजावर अन्तर्गत 16 शासकीय हायर सेकेण्डरी स्कूल संचालित है। (ख) 15 हायर सेकेण्डरी स्कूलों का उन्नयन क्रमशः हाई तत्पश्चात हायर सेकेण्डरी स्कूल के रूप में किया गया है। 01 मॉडल स्कूल बिजावर को मॉडल स्कूल (कक्षा 9 से 12) के रूप में वर्ष 2011-12 में स्थापित किया गया है। (ग) शा.उ.मा.वि. किशनगढ एवं शा.उ.मा. वि. खैराकलां भवन निर्माण की स्वीकृति उपरान्त भवनों के निर्माण का कार्य पूर्ण हो चुका है। 10 उ.मा.वि. में राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान योजनान्तर्गत विद्यालयों में सुदृढ़ीकरण के तहत अतिरिक्त कक्ष स्वीकृत किए गए हैं। शेष भवन निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करेगा।
छात्रावास एवं आश्रम की संख्या
[आदिम जाति कल्याण]
136. ( क्र. 2872 ) श्री पुष्पेन्द्र नाथ पाठक : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र बिजावर में स्थित अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति एवं आदिम जाति विभाग के छात्रावास/आश्रम में वर्तमान में अलग-अलग छात्र संख्या कितनी है? वर्ष 2014 से प्रश्न दिनांक तक छात्र-छात्राओं की अलग-अलग संख्या बतायें। (ख) प्रश्नांश (क) के अनुक्रम में उक्त छात्रावासों/आश्रम में वर्ष 2014 से प्रश्न दिनांक तक कितना बजट किस मद में प्राप्त हुआ? कितना खर्च हुआ?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जिला छतरपुर के विधानसभा क्षेत्र बिजावर में वर्ष 2014 से प्रश्न दिनांक तक छात्रावास/आश्रम की विस्तृत जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) छात्रावास/आश्रमों में वर्ष 2014 से प्रश्न दिनांक तक बजट की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है।
एच.आई.व्ही. पॉजिटिव मरीजों के रोकथाम एवं इलाज
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
137. ( क्र. 2899 ) श्री जालम सिंह पटेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नरसिंहपुर जिले में वर्ष 2012-13, 2013-14, 2014-15, 2015-16, 2016-17 में कितने एच.आई.व्ही. पॉजिटिव मरीज मिले वर्षवार जानकारी प्रदान करें? (ख) एच.आई.व्ही. पॉजिटिव मरीजों की रोकथाम एवं इलाज के लिए क्या योजना बनाई गई है? (ग) एच.आई.व्ही. पॉजिटिव की संख्या किस कारण से बढ़ती है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) प्रश्नांकित अवधि में नरसिंहपुर जिले से वर्षवार प्रतिवेदित एच.आई.व्ही. पॉजिटिव व्यक्तियों की संख्या निम्नानुसार है:-
क्रमांक |
वर्ष |
एच.आई.व्ही. पॉजिटिव की संख्या |
|
2012-13 |
10 |
|
2013-14 |
26 |
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2014-15 |
17 |
|
2015-16 |
16 |
|
2016- 17 (जनवरी 2017 तक) |
06 |
(ख) राष्ट्रीय एड्स नियंत्रण संगठन, भारत सरकार द्वारा राष्ट्रीय स्तर पर एच.आई.व्ही./एड्स की रोकथाम हेतु राष्ट्रीय एड्स नियंत्रण कार्यक्रम का चरण-04 की योजना बनाकर संचालित है, जिसके अन्तर्गत एच.आई.व्ही./एड्स के प्रति जागरूकता हेतु प्रचार-प्रसार गतिविधियाँ आयोजित की जाती हैं। साथ ही एच.आई.व्ही./एड्स की जाँच हेतु एकीकृत परामर्श एवं जाँच केन्द्र संचालित हैं। एच.आई.व्ही. पॉजिटिव मरीजों के इलाज हेतु प्रदेश में चिकित्सा महाविधालय एवं जिला चिकित्सालय स्तर पर ए.आर.टी. (एन्ट्रीरेट्रो वायरल थैरेपी) केन्द्र संचालित है। (ग) उपलब्ध जानकारी के अनुसार एच.आई.व्ही. संक्रमण फैलने के चार मुख्य कारण हैं- 1. असुरक्षित यौन संबंधों के कारण। 2. एच.आई.व्ही. संक्रमित निडिल सीरिंजों के पुन: प्रयोग से। 3. एच.आई.व्ही. संक्रमित माँ से उसके गृभस्थ शिशु में। 4. एच.आई.व्ही. संक्रमित रक्त या रक्त उत्पाद देने से।
झोलाछाप डाक्टरों द्वारा दवाखाने का संचालन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
138. ( क्र. 2913 ) श्री संजय शाह मकड़ाई : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) हरदा जिले के टिमरनी विधानसभा क्षेत्र में कितने झोलाछाप डाक्टरों का दवाखाना संचालित हैं? नामवार पते सहित विस्तृत जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) टिमरनी विधानसभा क्षेत्र में विगत 5 वर्षों में झोलाछाप डॉक्टरों के इलाज से कितने मरीजों को शासकीय अस्पताल व अन्य अस्पताल में रिफर किया गया? (ग) प्रश्नांश (क), (ख) संदर्भ में झोला, छाप डॉक्टरों के पास शासन द्वारा निर्धारित शैक्षणिक योग्यता है अथवा नहीं? यदि नहीं, तो ऐसे झोलाछाप डॉक्टरों को प्रतिबंधित करने के लिए शासन द्वारा क्या-क्या कार्यवाही की गई है व की जा रही है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) हरदा जिले के टिमरनी विधानसभा क्षेत्र सर्वेक्षण में 24 झोलाछाप डॉक्टर पाये गये। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) किसी भी मरीज को रेफर नहीं किया गया। (ग) नहीं है। झोलाछाप डाक्टरों को प्रतिबंधित करने के लिये टीम का गठन कर म.प्र. उपचर्यागृत तथा रूजोपचार संबंधी अधिनियम 1973 के अपंजीकृत एवं अवैध रूप से संचालित निजी चिकित्सा संस्थाओं तथा क्लीनिक/झोलाछाप डॉक्टरों के विरूद्ध कार्यवाही की गई है। खण्ड चिकित्सा अधिकारी सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र टिमरनी द्वारा दो झोलाछाप डाक्टरों पर आपाराधिक प्रकरण दर्ज कराये गये, जिसमें एक श्री रामचरण लोंगरे निजी चिकित्सा व्यवसायी ग्राम पानतलाई तहसील रहटगांव को न्यायालयीन प्रकरण में माननीय न्यायालय द्वारा अवैधानिक चिकित्सा व्यवसाय करने के कारण 02 वर्ष की सजा सुनाई गई है। दूसरे अन्य झोलाछाप चिकित्सा व्यसायी श्री अधीर कुमार राय ग्राम रहटगांव का प्रकरण माननीय न्यायालय में विचारधीन है।
सामुदायिक एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के सम्बंध में
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
139. ( क्र. 2934 ) श्रीमती संगीता चारेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा सैलाना विधानसभा में कुपोषण को दूर करने के क्या-क्या प्रयास किए गए? इन पर विगत तीन वर्षों में कितना व्यय किया गया? कितने हितग्राहियों को इसका लाभ दिया गया? (ख) सामुदायिक एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र सैलाना/बाजना/रावटी/ सरवन/बेडदा एवं शिवगढ़ में प्रसव के लिए आने वाली महिलाओं को क्या-क्या सुविधाएं प्रदान की जाती हैं? इस सम्बंध में लापरवाही व प्रसव वाली महिलाओं के साथ अच्छा व्यवहार न किए जाने की कितनी शिकायतें तीन वर्षों में प्राप्त हुई? विभाग द्वारा इन पर क्या कार्यवाही की गई? (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित स्वास्थ्य केन्द्रों पर किस-किस श्रेणी के कितने पद रिक्त हैं? इन रिक्त पदों की पूर्ति हेतु विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की जा रही है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) स्वास्थ्य विभाग द्वारा सैलाना विधानसभा में कुपोषण को दूर करने हेतु किये गये प्रयास, विगत तीन वर्षों में किया गया व्यय एवं लाभांन्वित हितग्राहियों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा सैलाना विधानसभा में कुपोषण को दूर करने हेतु किये गये प्रयास, विगत तीन वर्षों में किये गये व्यय एवं लाभान्वित हितग्राहियों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ख) सामुदायिक एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, सैलाना/बाजना/रावटी/सरवन/बेडदा एवं शिवगढ़ में महिलाओं को प्रसव एवं प्रसव पश्चात परिवहन, प्रसव सुविधा, भर्ती अवधि में भोजन, प्रसव पश्चात जननी सुरक्षा योजना अंतर्गत राशि, नवजात शिशुओं का टीकाकरण व देखभाल आदि सुविधाएं प्रदाय की जाती है। प्रश्नावाधि में कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित स्वास्थ्य केन्द्रों पर प्रथम श्रेणी में 06 पद, द्वितीय श्रेणी में 06 पद, तृतीय श्रेणी में 49 पद एवं चतुर्थ श्रेणी में 20 पद रिक्त हैं। विभाग द्वारा रिक्त पदों की पूर्ति हेतु सतत् प्रक्रिया जारी है।
आदिवासी विकास विभाग की घोषणाएं
[आदिम जाति कल्याण]
140. ( क्र. 2935 ) श्रीमती संगीता चारेल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2015-16,2016-17 में आदिवासी विकास विभाग रतलाम से संबंधित मुख्यमंत्री जी द्वारा क्या-क्या घोषणाएं की गई थीं? विभाग द्वारा अब तक इन घोषणाओं को पूरा करने के लिए क्या-क्या कार्यवाही की गई है? (ख) आदिवासी विकास विभाग को वित्तीय वर्ष २०१५-१६ व २०१६-२०१७ में प्रश्न दिनांक तक कितना-कितना आवंटन प्राप्त हुआ तथा इससे कौन-कौन से कार्यों की स्वीकृति जारी की गई? कार्यवार मय लागत जानकारी प्रदान करें? ग्राम पंचायतों में निर्माण कार्य स्वीकृत किए जाने के क्या नियम हैं? (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में वित्तीय वर्ष २०१५-१६ व २०१६-२०१७ में निर्माण कार्य से संबंधित किन किन जनप्रतिनिधियों द्वारा कितने-कितने प्रस्ताव दिए गए? प्रस्तावों पर विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) रतलाम जिले में माननीय मुख्यमंत्री जी द्वारा की गई घोषणाओं की जानकारी एवं की कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) रतलाम जिले में वित्तीय वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में प्राप्त आवंटन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' एवं स्वीकृत कार्यों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। आदिवासी बस्ती विकास योजना नियम 2005 यथा संशोधित 2014 में उल्लेखित प्रावधान अनुसार कार्य स्वीकृत किये जाते हैं। (ग) प्रश्नांकित अवधि में जनप्रतिनिधियों से प्राप्त प्रस्ताव एवं की गई कार्यवाही से संबंधित जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' अनुसार है।
अ.जा./अ.ज.जा. बाहुल्य क्षेत्र में बिजली व्यवस्था
[आदिम जाति कल्याण]
141. ( क्र. 2943 ) श्री संजय शाह मकड़ाई : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या हरदा जिले की टिमरनी विधानसभा क्षेत्र में अ.जा./अ.ज.जा. जातियों की बस्तियों आबादी का 50 प्रतिशत अधिक अ.जा./अ.ज.जा. के परिवारों तथा आर्थिक द़ष्टि से कमजोर लघु एवं सीमांत कृषकों को चिन्हित किया गया है? यदि हाँ, तो संख्यावार जानकारी उपलब्ध करायें? (ख) टिमरनी विधानसभा क्षेत्र में चिन्हित कितनी बस्तियों/मजरे टोलों में विगत 5 वर्षों में विद्युत लाईन पहुँचाई जा चुकी हैं? कितनी शेष रही हैं? शेष के लिये शासन द्वारा क्या योजना तैयार की जा रही है? (ग) क्या हरदा जिले के विधानभा क्षेत्र टिमरनी में अ.जा./अ.ज.जा. एवं आर्थिक दष्टि से कमजोर कृषकों के खेतों में पानी सप्लाई हेतु विगत 5 वर्षों में नि:शुल्क विद्युत सर्विस लाइन पहुँचाई गई? यदि हाँ, तो कहाँ-कहाँ? (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में विभाग द्वारा विद्युत विभाग को विगत 5 वर्षों में प्रश्न दिनांक तक कितनी राशि कितने प्रकरणों के विरूद उपलब्ध करायी गई है?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी नहीं। (ख) हरदा जिले की टिमरनी विधानसभा क्षेत्र में बस्तियों का चिन्हांकन नहीं किया गया है, परन्तु विगत 05 वर्षों में अनुसूचित जनजाति के 05 ग्रामों में विद्युतीकरण कार्य तथा 14 ग्रामों के 160 कृषकों के खेतों में पंपों के ऊर्जीकरण विद्युत लाईन पहुँचाई गई है। वित्तीय संसाधनों की उपलब्धता के आधार पर कार्य किया जाता है। (ग) जी हाँ। अनुसूचित जनजाति वर्ग के कृषकों के खेतों में पानी सप्लाई हेतु विगत 05 वर्षों में कराये गये कार्यों की ग्रामवार जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) प्रश्नांश (ग) के परिप्रेक्ष्य में विद्युत विभाग को विगत 05 वर्षों में सुपरविजन चार्जेस के रूप में अनुसूचित जनजाति विद्युतीकरण योजना अन्तर्गत कुल 116 प्रकरणों में कुल राशि रूपये 7.72 लाख उपलब्ध करायी गई है।
बैतूल जिले में अनुसूचित जाति के कुओं एवं बोरवेल पर किये गये ऊर्जीकरण
[अनुसूचित जाति कल्याण]
142. ( क्र. 2945 ) श्री चन्द्रशेखर देशमुख : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बैतूल जिले में दिनांक 1 जनवरी 2014 से 31 जनवरी 2017 तक अनुसूचित जाति के कुओं तथा बोरवेल के ऊर्जीकरण के कितने कार्य स्वीकृत किये गये? इनकी सूची कार्य नाम, लागत, कार्य एजेंसी नाम, एजेंसी को किये भुगतान की जानकारी देवे। (ख) कितने स्थानों पर कुओं तथा बोरवेल जहाँ ऊर्जीकरण हुआ है? प्रश्न दिनांक तक चालू हालत में है, इनकी सूची दें। (ग) क्या सभी स्थान जहां ऊर्जीकरण किया है, वहां कुओं एवं बोरवेल में पानी है या नहीं इसकी जाँच की गयी थी? यदि हाँ, सभी स्थानों पर पानी की उपलब्धता के प्रमाण पत्रों की छायाप्रतियाँ दें। (घ) कार्य एजेंसी द्वारा गुणवत्तापूर्ण कार्य न करने के कारण कई स्थानों पर कुएं तथा बोरवेल बन्द पड़े हैं, इसकी जाँच कराकर कब तक चालू कर दिये जायेंगे? समय-सीमा बतायें। गुणवत्तापूर्ण कार्य न करने वाली कार्य एजेंसी पर कार्यवाही न करने वाले अधिकारियों एवं कार्य एजेंसी के विरुद्ध शासन कब तक कार्यवाही करेगा?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) 201 कार्य स्वीकृत किये गये हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘अ’ अनुसार है। (ख) 159 चालू हालत में हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘ब’ अनुसार है। (ग) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘स’ अनुसार है। (घ) 34 कार्यों में म.प्र.वि.वि.कं.लि. द्वारा विद्युत प्रवाह प्रारंभ नहीं किये जाने के कारण बोरवेल बंद हैं। 34 में से 01 कृषक द्वारा विद्युत कनेक्शन नहीं लिया गया है एवं 02 कार्यों के पोल गिर गये हैं। इनके संबंध में नियमानुसार कार्यवाही की जायेगी।
खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा नमूनों की जाँच
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
143. ( क्र. 2946 ) श्री चन्द्रशेखर देशमुख : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बैतूल जिले के खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा वर्ष 2015-16 में कितने नमूने जाँच हेतु लिये गये? लीगल व सर्विलेंस की जानकारी अलग-अलग देवें। (ख) क्या सभी खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा निर्धारित लक्ष्य अनुरूप नमूने लिये हैं? यदि नहीं, तो संबंधितों पर क्या कार्यवाही की जायेगी? (ग) क्या खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा स्थानीय निर्माताओं की जगह ब्रांडेड कम्पनियों के अधिक नमूने लिये गये हैं? यदि हाँ, तो क्यों? ऐसी मनमानी करने वाले अधिकारियों पर शासन कब तक कार्यवाही करेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) बैतूल जिले में खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा वर्ष 2015-16 में कुल 278 नमूने जाँच हेतु लिये गये, जिसमें लीगल-258 व सर्विलेंस-39 लिये गये। (ख) जी हाँ, शेष प्रश्नांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम, 2006, विनियम, 2011 के अनुरूप नमूने लेने की कार्यवाही की गई है। शेष प्रश्नांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
डॉ. अम्बेडकर चिकित्सा सहायता योजना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
144. ( क्र. 2949 ) श्री मुकेश पण्ड्या : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) डॉ. अम्बेडकर चिकित्सा सहायता योजना क्या है? यह योजना कब से लागू की गई है? (ख) इस योजना के क्रियांन्वयन के लिये क्या-क्या कागजात आवश्यक हैं? आवेदन कहाँ करना होता है तथा कौन-कौन से अस्पताल और कौन-कौन सी बिमारियों को इस योजना के तहत पंजीकृत किया गया है? (ग) उज्जैन जिले में कितने लोग इस योजना के तहत लाभांवित हुए है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) डॉ. अम्बेडकर चिकित्सा सहायता योजना स्वास्थ्य विभाग द्वारा संचालित नहीं की जा रही है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
आवासीय पट्टे का वितरण
[विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्धघुमक्कड़ जाति कल्याण]
145. ( क्र. 2950 ) श्री मुकेश पण्ड्या : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) बड़नगर विधानसभा क्षेत्र में विमुक्त और घुम्मकड़ जन जाति वर्ग के कितने लोग निवास करते है? (ख) बड़नगर विधानसभा क्षेत्र के ग्राम खरसौद खुर्द, मौलाना, रणवा, सुन्दरबाद, बालौदा लक्खा, में नट समाज के कितने लोग निवास करते हैं? (ग) क्या नट समाज के लोगों को आवासीय पट्टे प्रदान किये गये हैं? यदि हाँ, तो कितने लोगों को और यदि नहीं, तो कब तक इन लोगों को आवासीय पट्टे प्रदान कर दिये जायेंगे?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) बड़नगर विधानसभा क्षेत्र में विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जनजाति लोगों के निवास करने सबंधित चिन्हांकन ग्राम पंचायतों के माध्यम से समग्र पोर्टल पर कराया जाने की कार्यवाही प्रचलित है। (ख) बड़नगर विधानसभा क्षेत्र के ग्राम खरसौद खुर्द, मौलाना, रणवा, सुन्दरबाद, बालौदा लक्खा में नट समाज के कुल 702 लोग निवासरत हैं। ग्रामवार जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) संबंधित ग्राम पंचायतों से प्राप्त जानकारी अनुसार प्रश्न में उल्लेखित ग्रामों में निवासरत नट समाज के 11 परिवारों को पट्टे प्रदान किये गये हैं। शेष परिवारों को पट्टा वितरण हेतु पात्रता परीक्षण कराया जाकर कार्यवाही नियमानुसार की जावेगी। ग्रामवार जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
अंशकालीन सफाई कार्मचारियों को नियमित करना
[आदिम जाति कल्याण]
146. ( क्र. 2958 ) श्रीमती शीला त्यागी : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या रीवा जिले के आदिम जाति कल्याण विभाग में छात्रावास में कार्यरत सफाई कर्मियों को नियमित करने का प्रावधान है? (ख) यदि हाँ, तो कब तक नियमित कर दिया जावेगा?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ग) सफाई कर्मियों को नियमित करने का कोई प्रावधान नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
कम्पाउण्डर के विरूद्ध दण्डात्मक कार्यवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
147. ( क्र. 2959 ) श्रीमती शीला त्यागी : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सामुदायिक स्वास्थ केन्द्र रामपुर बद्येलान जिला सतना में श्रीमति अन्जू विश्वकर्मा स्टाफ नर्स तथा श्री जितेन्द्र सिंह कम्पाउण्डर के पद पर पदस्थ है। (ख) प्रश्नांश (क) यदि हाँ, तो क्या श्रीमति अन्जू विश्वकर्मा द्वारा श्री जितेन्द्र सिंह कम्पाउण्डर के खिलाफ अश्लील हरकत, धमकी व अनैतिक सम्बन्ध स्थापित करने की शिकायत थाना रामपुर बघेलान में दिनांक 06/11/2016 को तथा दिनांक 08/11/2016 को सी.एम.ओ.एच. सतना को आवेदन दिया है, शिकायती आवेदन की प्रति देवें। (ग) प्रश्नांश ''ख'' के सन्दर्भ में आज दिनांक तक थाने तथा सी.ओ.एच. से क्या कार्यवाही की गई? कृत कार्यवाही से अवगत कराते हुये उसकी प्रतियां देवें। (घ) प्रश्नांश ''ग'' के संदर्भ में कार्यवाही न करने के लिए कौन दोषी है? दोषी अधिकारी एवं अपराधी जीतेन्द्र सिंह कम्पाउण्डर के खिलाफ कब तक दण्डात्मक कार्यवाही की जावेगी।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) हाँ, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र रामपुर बघेलान जिला सतना में श्रीमति अन्जू विश्वकर्मा स्टॉफ नर्स तथा जितेन्द्र सिंह कम्पाउण्डर के पद पर पदस्थ हैं। (ख) हाँ, श्रीमति अन्जू विश्वकर्मा स्टॉफ नर्स सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, रामपुर बघेलान द्वारा श्रीमति जितेन्द्र सिंह कम्पाउण्डर के विरूद्ध थाना रामपुर बघेलान में शिकायत दर्ज कराने की सूचना इस कार्यालय को नहीं दी गई है। महिला थाना सतना में दिनांक 17.12.2016 को अंजू विश्वकर्मा द्वारा एफ.आई.आर दर्ज कराई गई है तथा दिनांक 08.11.2016 को सी.एम.एच.ओ कार्यालय सतना में शिकायती आवेदन पत्र दिया था। शिकायती आवेदन की छायाप्रति संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) महिला थाना सतना में प्रकरण पर विवेचना जारी है। मु.चि. एवं स्वा. अधिकारी सतना द्वारा प्रकरण को जिला कलेक्टर के संज्ञान में लाते हुए श्री जितेन्द्र सिंह को कारण बताओ सूचना पत्र क्रं/स्था/2016/10143 सतना दिनांक 21.11.2016 जारी किया गया था। स्पष्टीकरण एवं बी.एम.ओ. दिनांक 25.11.2016 की टीप अनुसार सामु. स्वा. केन्द्र में किसी भी प्रकार की घटना की शिकायत नहीं की गई, एवं शिकायत को निराधार बताया। अतः किसी प्रकार की कार्यवाही नहीं की गई। (घ) बी.एम.ओ. के टीप दिनांक 25.11.2016 के अनुसार सामु. स्वा. केन्द्र में किसी भी प्रकार की घटना शिकायती नहीं की गई एवं शिकायती को निराधार बताया। अतः किसी प्रकार की कार्यवाही नहीं की गई।
अनुसूचित जनजाति वर्ग के कृषकों का पंपों का ऊर्जीकरण
[आदिम जाति कल्याण]
148. ( क्र. 2965 ) श्री इन्दर सिंह परमार : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश में अनुसूचित जनजाति वर्ग के कृषकों के पंपों के ऊर्जीकरण के तहत वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में विद्युत पोल, ट्रांसफार्मर स्थापित किये गये हैं? (ख) प्रश्नाश (क) में उल्लेखित योजना के तहत शाजापुर जिले में वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में कितने कृषकों के कुओं पर पंपों के ऊर्जीकरण का कार्य किया गया है? यदि नहीं, किया गया तो क्या कारण थे? (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित योजना के तहत क्या वर्ष 2017-18 में पंपों के ऊर्जीकरण का कार्य किया जावेगा? यदि हाँ, तो किस-किस श्रेणी के किसान पात्र होंगे।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में शाजापुर जिले में अनुसूचित जनजाति वर्ग के कृषकों के कुओं पर पंपो के ऊर्जीकरण के प्रस्ताव प्राप्त नहीं होने तथा निविदा में माननीय उच्च न्यायालय से स्थगन आदेश होने के कारण कार्य स्वीकृत नहीं किये गये। (ग) जी हाँ। प्रस्ताव प्राप्त होने पर, योजना की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति वर्ग के हितग्राहियों की संख्या
[विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्धघुमक्कड़ जाति कल्याण]
149. ( क्र. 3017 ) श्री सोहनलाल बाल्मीक : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) शासन द्वारा विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति वर्ग के हितग्राहियों के लिए कौन-कौन सी योजनायें संचालित की जा रही है? नियमावली सहित जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) सम्पूर्ण छिन्दवाड़ा जिले में विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति वर्ग के हितग्राहियों को वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में विभाग द्वारा कौन-कौन सी योजनाओं के अन्तर्गत लाभांवित किया गया है? (ग) शासन द्वारा विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति कल्याण विभाग छिन्दवाड़ा को वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में कितनी राशि का आवंटन प्रदान किया गया और उस राशि का उपयोग विभाग द्वारा कहाँ-कहाँ किया गया?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) प्रश्नाधीन अवधि में विमुक्त घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति वर्ग के हितग्राहियों के लिये विमुक्त जाति आवास योजना बस्ती विकास योजना, छात्रावास योजना, छात्रवृत्ति योजना, कन्या साक्षरता प्रोत्साहन योजना, आदि योजनाएं संचालित की जा रही है। जिनके नियमों की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) छिन्दवाड़ा जिले में प्रश्नाधीन अवधि में विमुक्त घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जाति वर्ग के छात्र-छात्राओं के लिये आवास सुविधा उपलब्ध कराये जाने हेतु विकास खण्ड सौसर एवं अमरवाड़ा में क्रमशः एक बालक छात्रावास एवं एक कन्या छात्रावास संचालित कर लाभांवित किया जा रहा है। इसके अतिरिक्त इस वर्ग के विद्यार्थियों को राज्य छात्रवृत्ति का वितरण स्कूल शिक्षा विभाग के माध्यम से कराया जा रहा है (ग) छिन्दवाड़ा जिलें में प्रश्नाधीन अवधि में राशि रूपये 30.20 का आवांटन प्रदान किया गया उक्त राशि का उपयोग छात्रावास संचालन हेतु सामग्री पूर्ति मद में एवं छात्र-छात्राओं की शिष्यवृत्ति हेतु उपयोग किया गया।
छिन्दवाड़ा जिले में मेडिकल कॉलेज प्रारंभ किया जाना
[चिकित्सा शिक्षा]
150. ( क्र. 3018 ) श्री सोहनलाल बाल्मीक : क्या राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासन द्वारा छिन्दवाड़ा जिले में मेडिकल कॉलेज खोले जाने की स्वीकृति प्रदान करने के पश्चात् मेडिकल कॉलेज प्रारंभ किए जाने हेतु विभाग द्वारा अभी तक क्या-क्या कार्यवाही की गई है? (ख) शासन द्वारा छिन्दवाड़ा जिले में मेडिकल कॉलेज प्रारंभ किए जाने की प्रक्रिया को कब तक पूर्ण कर लिया जायेगा एवं कब तक मेडिकल कॉलेज प्रांरभ कर दिया जायेगा? (ग) क्या मेडिकल कॉलेज प्रारंभ किए जाने के संबंध में विभाग द्वारा कार्यवाही करने में काफी विलंब किया जा रहा है? अगर हाँ, तो विलंब का क्या कारण है?
राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा ( एडवोकेट शरद जैन ) : (क) भारत सरकार से चिन्हित किये जाने के पश्चात् राज्य सरकार की स्वीकृति के लिये प्रक्रिया प्रारंभ की गई। परियोजना का विस्तृत परियोजना प्रतिवेदन तैयार कर भारत सरकार से स्वीकृत कराया गया। नवीन मेडिकल कॉलेज के लिये भूमि आवंटित कर पुराने भवनों को हटाया जाकर निर्माण हेतु रिक्त भूमि उपलब्ध कराई गई है। (ख) निर्माण कार्य संबंधी सभी प्रक्रियाओं को पूर्ण कर लिया गया है। पदों/उपकरण की स्वीकृति हेतु प्रकरण तैयार कर लिया गया है। वर्ष 2019 से मेडिकल कॉलेज प्रारंभ किया जाना लक्षित है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
छात्रावास/आश्रम की जानकारी
[अनुसूचित जाति कल्याण]
151. ( क्र. 3023 ) श्री आर.डी. प्रजापति : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छतरपुर जिले में कितने छात्रावास/आश्रम संचालित हैं? (ख) उक्त छात्रावास/आश्रमों में कितने अधीक्षक पदस्थ हैं? (ग) ऐसे कितने अधीक्षक हैं, जिनके पास दो या दो से अधिक छात्रावासों का चार्ज है? सूची प्रस्तुत करें। (घ) क्या अतिरिक्त प्रभार वाले छात्रावास सुचारू रूप से संचालित होते हैं? अतिरिक्त प्रभार के वाले छात्रावासों का प्रभार शिक्षा विभाग के अन्य पात्र शिक्षकों को क्यों नहीं दिया जाता है?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जिला छतरपुर में 94 छात्रावास/आश्रम संचालित हैं, जिनमें से अनुसूचित जाति के 80 एवं अनुसूचित जनजाति के 14 छात्रावास हैं। (ख) उक्त छात्रावास/आश्रमों में 63 अधीक्षक पदस्थ हैं। (ग) 22 अधीक्षकों के पास दो या दो से अधिक छात्रावासों का चार्ज है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) जी हाँ। अतिरिक्त प्रभार वाले अधिकतम छात्रावास/आश्रम एक ही परिसर/मुख्यालय में स्थित हैं, जिससे उनका संचालन सुचारू रूप से हो रहा है। इस कारण शिक्षा विभाग के पात्र अन्य शिक्षकों को प्रभार नहीं दिया गया है।
न्यूरो सर्जन की पदस्थी
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
152. ( क्र. 3024 ) श्री आर.डी. प्रजापति : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या छतरपुर के जिला अस्पताल व संबंधित अस्पतालों में न्यूरो सर्जन पदस्थ नहीं हैं एवं एक्सीडेन्ट व सिर की चोट के गंभीर मरीजों की संख्या अत्याधिक है? (ख) क्या प्रश्नांश (क) अनुसार उन मरीजों के इलाज हेतु ग्वालियर, भोपाल, झॉसी आदि में रिफर किया जाता है, जिससे मरीजों को शारीरिक व मानसिक हानि होती है? (ग) क्या छतरपुर जिला अस्पताल से मेडिकल कॉलेजों की दूरी अधिक है, जिससे कभी-कभी गंभीर मरीज समय पर मेडिकल कॉलेज व न्यूरो सर्जन के पास नहीं पहुंच पाता? (घ) जनहित से जुड़ी इस समस्या के निदान हेतु छतरपुर जिला अस्पताल में न्यूरो सर्जन की व्यवस्था कब तक की जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ, जी हाँ। (ख) जी हाँ, सेकेण्डरी रेफरल सेन्टर, जिला चिकित्सालय स्तर की संस्थाओं में न्यूरो सर्जन का पद स्वीकृत नहीं है एवं चिकित्सा महाविद्यालयों जिन्हें टरशयरी केयर सेन्टर के रूप में चिन्हित किया गया है, में न्यूरो सर्जन योग्यता के चिकित्सक उपलब्ध होते हैं। अतः गंभीर मरीजों को उक्त टरशयरी केयर सेन्टर्स में रेफर किया जाता है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। (घ) न्यूरो सर्जन का पद टरशयरी केयर (चिकित्सा महाविद्यालय स्तर) की संस्थाओं में स्वीकृत होता है एवं जिला चिकित्सालय स्तर की सस्थाओं (सेकेण्डरी रेफरल सेन्टर) में न्यूरो सर्जन का पद स्वीकृत नहीं होता है। प्रदेश में न्यूरो सर्जन चिकित्सकों की अत्यधिक कमी भी है। अतः पद स्वीकृति एवं पदस्थापना किए जाने में कठिनाई है।
आशा सहयोगिनियों के रिक्त पदों पर चिन्हांकन
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
153. ( क्र. 3025 ) श्री आर.डी. प्रजापति : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. शासन राज्य स्वास्थ्य समिति भोपाल के पत्र क्रमांक/एन/आर.एच.एम./2015-16, दिनांक 01.06.2015 के निर्देशानुसार आशा कार्यकर्ताओं का चिन्हांकन, आशा सहयोगिनियों के रूप में छतरपुर जिले में किया जाना था? (ख) क्या उक्त आदेश के परिपालन में पत्र क्रमांक 2439-54, दिनांक 30.11.2015 में खण्ड चिकित्साधिकारी सामु. स्वा. केन्द्र ईशानगर जिला छतरपुर द्वारा उक्त प्रक्रिया को पूर्ण कर आदेश जारी कर मुख्य चिकित्सा एवं स्वा. अधिकारी जिला छतरपुर को अग्रिम कार्यवाही हेतु भेजा था? उक्त आदेश पर चिन्हांकन की कार्यवाही प्रश्न दिनांक तक क्यों नहीं की गयी? कारण बतावें। (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार आदेश पत्र जारी होने के दिनांक 30.11.2015 से प्रश्न दिनांक तक उक्त संबंध में मुख्य चिकित्सा एवं स्वा. अधिकारी जिला छतरपुर द्वारा क्या कार्यवाही की गयी? क्या उक्त संबंध में जनप्रतिनिधियों के पत्र मुख्य चिकित्सा एवं स्वा. अधिकारी को भेजे गये उनका उत्तर दिया गया या नहीं? (घ) यदि शासन के आदेशों की मुख्य चिकित्सा एवं स्वा. अधिकारी जिला छतरपुर द्वारा समय-सीमा में कार्यवाही नहीं की गयी व जनप्रतिनिधियों के पत्रों का समय-सीमा में जवाब नहीं दिया गया तो क्यों एवं की गयी कार्यवाही की सूचना कब तक दी जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। खण्ड चिकित्सा अधिकारी, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, ईशानगर. जिला छतरपुर द्वारा चयनित सूची नियमानुसार नहीं होने से मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जिला छतरपुर द्वारा इस सूची को निरस्त कर दिया गया। (ग) मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जिला छतरपुर द्वारा तीन सदस्यीय समिति का गठन कर उक्त प्रकरण की जाँच करवाई गई एवं खण्ड चिकित्सा अधिकारी की चयन प्रक्रिया नियमानुसार नहीं होने से उक्त चयन सूची को निरस्त कर दिया। उक्त के संबंध में जनप्रतिनिधि के पत्र का उत्तर मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, जिला छतरपुर द्वारा दिया गया। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ठ अनुसार है। (घ) प्रश्नांश (ग) के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मुख्य कार्यपालन अधिकारी की नियुक्ति
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
154. ( क्र. 3029 ) श्री आरिफ अकील : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या वक्फ अधिनियम 1995 की धारा 23 के तहत बोर्ड के मुख्य कार्यपालन अधिकारी की नियुक्ति किए जाने का प्रावधान है? यदि हाँ, तो क्या वर्तमान मुख्य कार्यपालन अधिकारी की नियुक्त उक्त धारा के तहत हुई? यदि नहीं, तो इसके क्या कारण हैं? (ख) क्या मध्यप्रदेश वक्फ बोर्ड के पूर्व मुख्य कार्यपालन अधिकारी डॉ. एस.एम.एच. जैदी, दाऊद अहमद, एस.यू. सैय्यद के द्वारा अवैधानिक कार्य करने के फलस्वरूप भ्रष्टाचार की जाँच लोकायुक्त, आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो एवं शासन स्तर पर जाँचें प्रचलन में हैं? (ग) यदि हाँ, तो क्या प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित अधिकारियों द्वारा मुख्य कार्यपालन अधिकारी के पद पर रहते अवैधानिक एवं वक्फ हित के विरूद्ध कार्य किए जाने के फलस्वरूप इन अधिकारियों को बोर्ड में पुन: नियुक्त नहीं करने का सर्वसम्मति से बोर्ड बैठक में निर्णय पारित हुआ था? (घ) यदि हाँ, तो क्या प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित अधिकारियों में से कुछ को पुन: मध्यप्रदेश वक्फ बोर्ड का मुख्य कार्यपालन अधिकारी नियुक्त/पदस्थ करने की प्रक्रिया विचाराधीन है? यदि हाँ, तो बोर्ड निर्णय के विपरीत जाकर भ्रष्ट प्रवृत्ति के अधिकारी को किस नियम के तहत पदस्थ करने का नियम है?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग ( श्रीमती ललिता यादव ) : (क) जी हाँ। जी नहीं। इस संबंध में विभाग से सामान्य प्रशासन विभाग को प्रस्ताव भेजा गया था किन्तु प्रावधान के अनुसार अल्पसंख्यक वर्ग (मुस्लिम समुदाय का अधिकारी उपलब्ध न होने से) विभाग द्वारा श्री एस.के. फारूखी, कार्यपालन यंत्री, मध्यप्रदेश ऊर्जा विकास निगम, राजगढ़ को आगामी आदेश तक मुख्य कार्यपालन अधिकारी वक्फ बोर्ड में पदस्थ किया गया। (ख) जी हाँ। प्रश्नांश में उल्लेखित अधिकारियों के प्रकरण लोकायुक्त एवं विभागीय जाँच में दर्ज है। श्री दाऊद अहमद के विरूद्ध एक प्रकरण आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो में भी पंजीबद्ध है। (ग) जी हाँ। वक्फ अधिनियम के अनुसार वक्फ बोर्ड में नये अधिकारी को पदस्थ करने की प्रक्रिया राज्य शासन के विचाराधीन है। वर्तमान में पदस्थ मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री एस.के. फारूखी के विरूद्ध लोकायुक्त संगठन एवं आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो में कोई अपराधिक प्रकरण लंबित नहीं है। (घ) शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
लेपटॉप वितरण में अनियमितता
[स्कूल शिक्षा]
155. ( क्र. 3030 ) श्री आरिफ अकील : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा माननीय मुख्यमंत्री एवं मंत्रीगण सहित अन्य लोगों की उपस्थिति में मेधावी विद्यार्थियों को प्रोत्साहन समारोह दिनांक 24 अगस्त 2016 को भोपाल में आयोजित कर कक्षा 12वीं में 85 प्रतिशत अंक प्राप्त करने वाले छात्रों को लेपटॉप वितरित किए गए थे? यदि हाँ, तो कितने प्रतिशत अंक प्राप्त करने वाले छात्रों को लेपटॉप प्रदान किए जाने का प्रावधान है? जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) क्या यह भी सही है कि भोपाल की कु. आयशा समीन 12वीं में 84.80 प्रतिशत अंक प्राप्त करने वाली छात्रा की अपेक्षा 84.02 अंक प्राप्त करने वाली छात्रा को लेपटॉप प्रदान किये जाने के संबंध में प्रश्नकर्ता द्वारा पत्र क्रमांक 5633 दिनांक एक दिसम्बर 2016 के माध्यम से माननीय मुख्यमंत्री जी को अवगत कराया था। (ग) यदि हाँ, तो प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों इस लापरवाही के लिए कौन-कौन दोषी है? शासन द्वारा उनके विरूद्ध क्या तथा कब तक कार्यवाही की जावेगी? इसके अतिरिक्त उपरोक्त अवधि में भोपाल के कक्षा 12वीं में 84 प्रतिशत से अधिक अंक प्राप्त करने वाले छात्रों की सूची उपलब्ध कराते हुए यह भी अवगत करावें कि प्रावधान अनुसार 85 प्रतिशत अंक प्राप्त करने वाले किन-किन छात्रों को किन-किन कारणों से लेपटॉप प्रदान नहीं किए गए?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। कक्षा 12वीं हायर सेकेण्डरी की मुख्य परीक्षा में 85 प्रतिशत या उससे अधिक अंक अर्जित करने वाले विद्यार्थियों एवं 75 प्रतिशत या उससे अधिकर अंक अर्जित करने वाले अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति वर्ग के विद्यार्थियों को लेपटॉप क्रय हेतु राशि रू. 25 हजार प्रोत्साहन के रूप में देने का प्रावधान है। (ख) जी हाँ। (ग) प्रश्नांश ‘‘ख’’ में दर्शित पत्र के क्रम में परीक्षण कराने पर ये स्पष्ट हुआ है कि कुमारी शिवानी प्रजापति ओ.बी.सी. सत्यम कान्वेंट हायर सेकेण्डरी बैरसिया रोड, भोपाल से 84.20 प्रतिशत से उत्तीर्ण हुई है। 85 प्रतिशत से कम अंक प्राप्त होने के कारण लैपटॉप की राशि उन्हें प्रदाय नहीं की गई है। अतः प्रकरण में कोई दोषी नहीं होने से कार्रवाई का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। भोपाल जिले में सभी लैपटॉप हेतु पात्र विद्यार्थियों को लैपटॉप की राशि प्रदाय की जा चुकी है। शेषांश जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
अध्यापक संवर्ग की वेतन विसंगति
[स्कूल शिक्षा]
156. ( क्र. 3042 ) श्रीमती सरस्वती सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या कारण है कि अध्यापक संवर्ग के छठवें वेतनमान निर्धारण में 1998 में नियुक्त कर्मचारियों को जो क्रमोन्नति प्राप्त होकर पदोन्नत भी हो गए, उन्हें पदोन्नति का लाभ नहीं दिया जा रहा है? उन्हें इस प्रकार की गणना पर्ची जारी की गई है? उन्हें इसका लाभ दिया जाएगा या नहीं? (ख) शासन के अन्य कर्मचारियों को प्रथम पदोन्नति उपरांत 3 वर्ष या इसके समकक्ष वरिष्ठता अनुसार पदोन्नति दी जाती है किन्तु अध्यापक संवर्ग में 7 वर्ष निर्धारित किए गए हैं, क्यों? इसे घटाने का कोई प्रस्ताव शासन के पास है? यदि नहीं, तो कब तक ये प्रस्ताव बनाए जाएंगे? (ग) प्रदेश के जिलों में अध्यापक संवर्ग का वेतन निर्धारण में भिन्नता क्यों है? वेतन विसंगति को कब तक पूरा कर समान वेतन कर दिया जाएगा? (घ) अध्यापक संवर्ग को NPS कटौती ट्रेजरी से किए जाने का प्रावधान कब तक किया जाएगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) पदोन्नति का लाभ दिया जा रहा है। छठवें वेतनमान के अन्तर्गत अध्यापक संवर्ग को क्रमोन्नत वेतनमान दिये जाने के संबध में आदेश जारी करने की प्रक्रिया प्रचलित है। (ख) जी नहीं। अध्यापक संवर्ग हेतु नियुक्ति एवं सेवा शर्तों में सात वर्ष का अनुभव का प्रावधान है। जी नहीं। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) संवर्ग में वरिष्ठता निर्धारण सेवा अवधि की गणना वेतन वृद्धि की गणना में विसंगति/त्रुटि के कारण अंतर की स्थिति निर्मित हुई है। इसके समाधान के लिए उदाहरण सहित स्पष्टीकरण जारी करने की कार्यवाही प्रचलित है। (घ) अध्यापक संवर्ग को अंशदायी पेंशन योजना के अंशदान को सीधे कोषालय से काटकर जमा करने का प्रावधान वर्तमान में नहीं है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
विभागीय योजनांतर्गत किए गए कार्य
[आदिम जाति कल्याण]
157. ( क्र. 3093 ) कुँवर सौरभ सिंह : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नोत्तरी दिनांक 09.12.2016 में मुद्रित प्रश्न क्रमांक 1845 के प्रश्नांश (क) का उत्तर कटनी जिले में आदिम जाति कल्याण विभाग द्वारा संचालित योजनाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। विगत पाँच वर्षों में योजनावार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार व ''ग'' का उत्तर विभाग को एक शिकायत प्राप्त हुई, जिस पर कलेक्टर कटनी को पत्र क्रमांक 17965, दिनांक 17.08.2015 द्वारा लेख किया गया है? जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है बताया है तो परिशिष्ट ''क'' के बिन्दु क्रमांक 12, 16, 17, 18, 19, 20, 21, 22, 28 में दर्शाये मदों में पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' में दर्शायी अवधि में कहाँ-कहाँ यह राशि किस-किस कार्य में व्यय की गये हैं? व्यय राशि का सत्यापन किसके द्वारा किस दिनांक को किया गया है? (ख) संदर्भित प्रश्नांश (ग) के उत्तर में जिस शिकायत का जिक्र है, उसकी जाँच कलेक्टर कटनी को पत्र क्रमांक 17965, दिनांक 17.08.2015 से भेजी गई? उसकी जाँच क्या एक वर्ष से अधिक अवधि व्यतीत होने के बाद पूर्ण हुई है? यदि हाँ, तो जाँच प्रतिवेदन का विवरण उपलब्ध करावें तथा बताएं कि जाँच रिपोर्ट अनुसार कौन-कौन दोषी पाये गये और उनके विरूद्ध क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो कब तक जाँच पूर्ण करा ली जावेगी, बताएं और अब तक जाँच न होने के लिये कौन दोषी है?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) जी हाँ। प्रश्नांश अंतर्गत जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) कलेक्टर, कटनी द्वारा की गई जाँच प्रतिवेदन पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। अनियमिततायें नहीं पाई गई। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय एवं निजी अस्पताल में प्रसवों की संख्या
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
158. ( क्र. 3094 ) कुँवर सौरभ सिंह : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कटनी जिले में कितने शासकीय अस्पताल एवं प्रायवेट नर्सिंग होम (निजी अस्पताल) संचालित हैं? क्या प्रायवेट नर्सिंग होम के संचालन के मापदंड का पालन कराते हुये, मान्यता (रजिस्ट्रेशन) प्रदान की गई? शासन ने क्या मापदंड निर्धारित किये? (ख) प्रश्नांश (क) के शासकीय अस्पतालों में वर्ष 2014 से प्रश्नांश दिनांक तक कितनी गर्भवती महिलाओं को प्रसव हेतु भर्ती किया गया? इनमें से कितनी महिलाओं के सामान्य प्रसव द्वारा बच्चे हुये तथा कितनी महिलाओं के बच्चे ऑपरेशन से हुये? पृथक-पृथक विवरण दें। क्या शासन द्वारा प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व योजना की भी शुरूआत की है जिस पर गर्भवती महिलाओं की जानकारी हेतु पोर्टल और ऐप लाँच किया गया? यदि हाँ, तो संस्थावार विवरण दें। (ग) क्या शासन की राज्य बीमारी सहायता योजनान्तर्गत पीडि़तों को उपचार हेतु कटनी जिले किसी स्वास्थ्य संस्था से शासन द्वारा अनुबंध किया गया? यदि नहीं, तो पीडि़तों के उपचार हेतु कब तक कटनी जिले में इलाज की व्यवस्था की जावेगी? समयावधि बताएं।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) कटनी जिले में कुल 26 शासकीय चिकित्सालय एवं कुल 21 प्रायवेट नर्सिंग होम संचालित है। जी हाँ। मध्यप्रदेश उपचर्यागृह तथा रूजोपचार संबंधी स्थापनाएं अधिनियम 1973, नियम 1997 के तहत। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’अ’’ अनुसार है। जी हाँ, गर्भवती महिलाओं के पंजीयन हेतु www.pmsma.nhp.gov.in पोर्टल लॉच किया गया है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-’’ब’’ अनुसार है। (ग) जी नहीं। निजी चिकित्सालय द्वारा आवेदन प्रस्तुत करने पर पात्रतानुसार निर्णय लिया जावेगा।
कनिष्ठ लेखा परीक्षक के पद पर अवैधानिक तरीके से की गई पदोन्नति
[स्कूल शिक्षा]
159. ( क्र. 3105 ) श्री यादवेन्द्र सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या संयुक्त संचालक लोक शिक्षण रीवा संभाग के आदेश क्रमांक स्था-3/पदो./सहा. ग्रेड-2/2015/243 दिनांक 31.12.2016 द्वारा श्री दयाशंकर अवस्थी सहायक ग्रेड-2 की पदोन्नति लेखापाल के पद पर की गई थी? (ख) यदि हाँ, तो उक्त पदोन्नति आदेश जारी होने के पश्चात श्री दयाशंकर अवस्थी सहायक ग्रेड-2 पदोन्नति कार्यालय में निर्धारित समयावधि में उपस्थित न होकर पदोन्नति के आदेश विरूद्ध माननीय उच्च न्यायालय में याचिका क्रमांक W.P.6947/2016 दायर की गई थी? (ग) यदि हाँ, तो उक्त याचिका में पारित निर्णय दिनांक 28.04.2016 के परिपालन में अभ्यावेदन का निराकरण होने के बाद भी एक वर्ष बाद बिना विभागीय पदोन्नति समिति की अनुशंसा के श्री दयाशंकर अवस्थी सहायक ग्रेड-2 को कनिष्ठ लेखा परीक्षक के पद पर अवैधानिक पदोन्नति की गई है? (घ) यदि प्रश्नांश (ग) हाँ, तो नियम विरूद्ध पदोन्नति आदेश जारी करने वाले अधिकारी को कब तक निलंबित किया जाकर पदोन्नति आदेश को निरस्त किया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) श्री दयाशंकर अवस्थी की पदोन्नति कार्यालय संयुक्त संचालक लोक शिक्षण रीवा संभाग के आदेश क्रमांक स्था-3/पदो./सहा.ग्रेड-2/2015/243, दिनांक 31.12.15 द्वारा लेखापाल के पद पर की गई थी। (ख) एवं (ग) जी हाँ। (घ) पदोन्नति आदेश जारी करने वाले अधिकारी के विरूद्ध संचालनालय के पत्र क्रमांक स्था-1/सत/सी/37/रीवा/2017/307-308, दिनांक 17.02.2017 द्वारा कारण बताओ सूचना पत्र जारी किया गया है, संबधित का प्रतिवेदन प्राप्त होने पर नियमानुसार कार्यवाही की जायेगी।
जननी एक्सप्रेस योजना का ठेका अत्यधिक दर पर दिया जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
160. ( क्र. 3159 ) कुमारी निर्मला भूरिया : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) झाबुआ जिले में जननी एक्सप्रेस योजना अंतर्गत वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में किस-किस फर्म को ठेका दिया गया? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार जननी एक्सप्रेस योजना अंतर्गत वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में कितनी-कितनी निविदाएं प्राप्त हुई तथा किस-किस ठेकेदार की क्या-क्या दरें थी तथा विभाग द्वारा ठेका किस दर पर दिया गया वर्षवार अवगत करावें? (ग) क्या वर्तमान में जननी एक्सप्रेस योजना का ठेका 17 रूपये प्रति किलोमीटर पर दिया गया है? यदि हाँ, तो इतनी अत्यधिक दर पर ठेका देने का क्या कारण है? जबकि बाजार मूल्य 08 से 10 रूपये तक का ही है तथा अन्य जिलों में भी इसकी दरें कम है? (घ) झाबुआ जिलान्तर्गत जननी एक्सप्रेस योजना अंतर्गत कितने वाहन चल रहे हैं तथा वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में किस-किस ठेकेदार को कितनी राशि भुगतान की गई?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार वित्तीय वर्ष 2012-13 में निविदा आमंत्रित कर दिनांक 27/11/2012 से अगस्त 2015 तक के लिए निम्नवत संस्थावार जननी एक्सप्रेस योजना अंतर्गत ठेका दिया गया -
एजेन्सी का नाम एवं पता |
अनुबंधित मासिक दर |
श्री शंकरलाल राठौड़, पेटलावद |
24999 |
श्री झमकलाल पटवा |
25000 |
श्री गोपाल नंदलाल बरफा |
21500 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री युगल किशोर नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री युगल किशोर नायक, झाबुआ |
24930 |
सुश्री मनोरमा नायक, मेघनगर |
24999 |
सुश्री मनोरमा नायक, मेघनगर |
24999 |
श्री शेख मुख्तियार सैयद, मेघनगर |
24900 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री निलेश नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री युगल किशोर नायक, झाबुआ |
24930 |
श्री युगल किशोर नायक, झाबुआ |
24930 |
वित्तीय वर्ष 2015-16 में 1-सितंबर-2015 से 2016 तक के लिय जननी एक्सप्रेस वाहनों हेतु नवीन खुली निविदा प्रक्रिया अंतर्गत कुल 05 निविदाएं प्राप्त हुयी थी जिसमें से 02 निविदाकार भौतिक सत्यापन उपरांत अयोग्य पाई गई तथा 03 निविदाकार सफल पाए गये जिनका विवरण निम्न प्रकार है:-
क्र |
फर्म का नाम |
दर |
1. |
पण्डित टूर एवं ट्रेवल्स उज्जैन |
18.00 प्रति कि.मी. |
2. |
दीत्या टूर एवं ट्रेवल्स इन्दौर, |
18.10 प्रति कि.मी. |
3. |
कम्यूनिटी एक्शन थूर मोटिवेशन प्रोग्राम रीवा |
17.46 प्रति कि.मी. |
निविदाकार संस्था कम्यूनिटी एक्शन थू्र मोटिवेशन प्रोग्राम रीवा की दर न्यूनतम (रू. 17.46) होने से नियामानुसार जननी एक्सप्रेस वाहन का ठेका उक्त संस्था को प्रदाय किया गया। तथा वर्ष 2016-17 में कम्यूनिटी एक्शन थू्र मोटिवेशन प्रोग्राम रीवा को वित्तिय वर्ष 2016-17 में भी जननी एक्सप्रेस वाहनों के संचालन हेतु निरन्तर किया गया। (ग) जी नहीं, रू 17.00 नहीं बल्कि रू 17.46 प्रति किलोमीटर की दर से जननी एक्सप्रेस का ठेका दिया गया है। उक्त निविदाओं में से सबसे न्यूनतम दर रू. 17.46/- कम्यूनिटी एक्शन थू्र मोटिवेशन प्रोग्राम रीवा की प्राप्त हुयी थी, इस कारण नियमानुसार उक्त संस्था को ठेका दिया गया। (घ) 20 वाहने संचालित है। प्रश्नावधि में वर्षवार भुगतान की गई राशि का विवरण निम्नानुसार है।
ठेकेदार का नाम |
वित्तीय वर्ष |
||
2014-15 |
2015-16 |
2016-17 |
|
श्री शंकरलाल राठौड़, पेटलावद |
523389 |
368811 |
0 |
श्री झमकलाल पटवा |
465011 |
415340 |
0 |
श्री गोपाल नंदलाल बरसा |
253480 |
345188 |
0 |
श्री रमणलाल नायक, झाबुआ |
3158549 |
2021706 |
0 |
श्री युगल किशोर नायक, झाबुआ |
1261289 |
1001808 |
0 |
सुश्री मनोरमा नायक, मेघनगर |
696975 |
383574 |
0 |
श्री शेख मुख्तियार सैयद, मेघनगर |
316755 |
263238 |
0 |
श्री निलेश नायक, झाबुआ |
361990 |
282786 |
|
कम्यूनिटी एक्सन थू्र मोटिवेशन प्रोग्राम रीवा |
0 |
5210990 |
795588 |
स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों के अटेचमेन्ट
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
161. ( क्र. 3160 ) कुमारी निर्मला भूरिया : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला चिकित्सालय झाबुआ में वर्ष 2014-15, 2015-16 एवं 2016-17 में कितने अधिकारी/कर्मचारियों के अटेचमेन्ट कहाँ-कहाँ और कब-कब किये गये है? (ख) अधिकारी/कर्मचारियों के अटेचमेन्ट किन कारणों से ओर किसके आदेश पर किये गये है? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार किये गये अटेचमेन्ट में से कितने अटेचमेन्ट समाप्त किये तथा कितने कर्मचारी/अधिकारी अभी भी अटेचमेन्ट में कार्यरत है? क्या इनका अटेचमेन्ट समाप्त किया जावेगा यदि हाँ, तो समय-सीमा बतावें?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र रामा में दो नेत्र चिकित्सा सहायक पदस्थ होने के कारण जिला चिकित्सालय, झाबुआ में वर्ष 2014-15 में श्री दिनेश कुमार अग्रवाल, नेत्र चिकित्सा सहायक, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, रामा को जिला चिकित्सालय, झाबुआ में कार्य करने हेतु आदेशित किया गया है। वर्ष 2015-16 एवं वर्ष 2016-17 में किसी भी अधिकारी एवं कर्मचारी का अटेचमेंट नहीं किया गया है। (ख) जिला चिकित्सालय, झाबुआ 200 बिस्तरीय अस्पताल होकर जिले की एकमात्र रेफरल संस्था है जिसमें समस्त जिले से ऑखों एवं समस्त प्रकार के मरीजों को जिले के अधीनस्थ चिकित्सालय से रेफर किया जाता है, नेत्र कार्य की अधिकता होने के कारण में नेत्र चिकित्सा सहायक को प्रशासकीय कार्य सुविधा की दृष्टि से कार्य करने हेतु आदेशित किया गया है। (ग) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, रामा में एक नेत्र चिकित्सा सहायक पदस्थ है एवं जिला चिकित्सालय, झाबुआ में कार्य अधिकता के कारण जिले के अंदर ही कार्य करने हेतु आदेशित किया गया है। जी हाँ, निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है।
सेवा पुस्तिका में अंकित प्रविष्टियों की पुष्टि
[आदिम जाति कल्याण]
162. ( क्र. 3167 ) श्री हर्ष यादव : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ध्यानाकर्षण सूचना क्रमांक - 157, विधानसभा सत्र जुलाई 2016 में प्रस्तुत विभागीय टीप अनुसार संबंधित अपर संचालक की सेवा पुस्तिका के प्रथम पृष्ठ पर अंकित प्रविष्टियों अनुसार सभी शैक्षणिक दस्तावेज सही होने की पुष्टि किन-किन अधिकारियों ने की थी? नाम व पद व वर्तमान पदस्थापना बतावें? (ख) उपरोक्त प्रश्नांश (क) अनुसार सेवा पुस्तिका के प्रथम पृष्ठ पर अंकित प्रविष्टियों के आधार पर एम.ए.-1983 जे.एम.यू. नई दिल्ली भूगोल, पी.एच.डी. सेकेण्ड ईयर 1987 जे.एम.यू. नई दिल्ली भूगोल एवं एम.ए. (एस.ओ.सी.) बी.पी.एल. यूनिवर्सिटी सोशियोलॉजी की मार्कशीटों और संबंधित अभिलेखों की जानकारी उपलब्ध करावें? (ग) सर्विस बुक के प्रथम पृष्ठ पर इंद्राज अनुसार कौन-कौन से अभिलेख शासन-कार्यालय में अनुपलब्ध हैं? अभिलेख अनुपलब्धता की एफ.आई.आर. अब तक क्यों नहीं कराई गई? कब तक कराई जायेगी? नहीं तो क्यों।
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) श्री व्ही.एस. वर्मा, संयुक्त संचालक, आदिम जाति अनुसंधान एवं विकास संस्था, भोपाल द्वारा वर्तमान में सेवानिवृत्त। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) कोई नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
स्कूल शिक्षा विभाग में अपूर्ण कार्य
[स्कूल शिक्षा]
163. ( क्र. 3171 ) श्री नारायण त्रिपाठी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मैहर विधान सभा क्षेत्र में स्कूल शिक्षा विभाग से संबंधित क्या-क्या घोषणायें वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में माननीय मुख्यमंत्री महोदय द्वारा की गई थी? (ख) प्रश्नांश (क) वर्णित घोषणाओं में से कौन-कौन से कार्य स्वीकृत किये जा चुके हैं? किन-किन घोषणाओं की पूर्ति शेष है? इन पर क्या कार्यवाही की जा रही है? (ग) प्रश्नांश (क) वर्णित कार्यों में निर्माण कार्य कौन-कौन से है? इनकी वर्तमान स्थिति क्या है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) से (ग) प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं से संबंधित जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ पर एवं हाईस्कूल/हायर सेकेन्डरी स्कूलों से संबंधित जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब पर है।
अमानक खाद्य पदार्थों पर कार्यवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
164. ( क्र. 3175 ) श्री बहादुर सिंह चौहान : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रकरण क्रमांक 6139 दिनांक 14.03.2016 के उत्तर में वर्णित जिन फर्मों के प्रकरण सक्षम न्यायालय में विचाराधीन है, उनकी वर्तमान स्थिती के बारे में बतावें इनमें विगत 1 वर्ष में कितनी तारीखे लगी प्रकरणवार बतावें जिन प्रकरणों में शास्ति राशि वसूली हेतु सक्षम न्यायालय को पत्र लिखा गया उनमें कितनी राशि की वसूली हुई? (ख) दिनांक 01.01.2016 से 31.01.2017 तक उज्जैन जिले में कितनी अमानक मिथ्याछाप एवं मिलावटी नकली खाद्य सामग्री के प्रकरण बनाये गये? जानकारी विधानसभा क्षेत्रवार देवें। (ग) विभाग द्वारा कितनी आटा मिलों, आइल मिलों, मैदा मिलों, पान मसाला कंपनियों, घी उत्पादक मिलों, मसाला उद्योगों के सैंपल दिनांक 01.01.2014 से 31.01.2017 तक लिये? उनमें कितनों के सेम्पल फेल/पास हुए की जानकारी पृथक-पृथक वर्षवार बतावें? उज्जैन जिले में विधानसभा क्षेत्रवार बतावें।
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) प्रकरण क्रमांक 6139 दिनांक 14.03.2016 के उत्तर में वर्णित जिन फर्मों के प्रकरण सक्षम न्यायालय में 123 प्रकरण विचाराधीन थे। उनमें 63 प्रकरण माननीय न्यायालय द्वारा निराकृत किये जा चुके हैं, शेष 60 प्रकरण वर्तमान में न्यायालय में विचाराधीन हैं। विचाराधीन प्रकरणों में माननीय न्यायालय का क्षेत्राधिकार है कि प्रकरणें में कब-कब तारीखें लगाई जावेंगी। माननीय न्यायालय द्वारा 01.01.2012 से 31.12.2015 तक विचाराधीन 140 प्रकरणों में से 80 प्रकरणें का निराकरण किया जाकर 3936500/- शास्ति अधिरोपित की गई है एवं शास्ति वसूली की राशि भी माननीय न्यायालय में जमा की जाती है। माननीय न्यायालय से निवेदन करने पर ज्ञात हुआ कि 5.30 लाख रु. की शास्ति की राशि वसूल की जा चुकी है। (ख) दिनांक 01.01.2016 से 31.01.2017 तक उज्जैन जिले में अवमानक, मिथ्याछाप एवं मिलावटी नकली खाद्य सामग्री के विधानसभा क्षेत्र उज्जैन उत्तर से 15, उज्जैन दक्षिण से 15, घटिया से 4, महिदपुर से 2, नागदा-खाचरौद से 2, बड़नगर से निरंक,तराना से निरंक, कुल 38 प्रकरण पाये गये। (ग) उज्जैन जिले में विभाग द्वारा आटा मिलों, मैंदा मिलों, आईल मिलों, पान मसाला कम्पनियों, घी उत्पादक मिलों, मसाला उद्योगों के लिये गये सेम्पल जो फेल पास हुए है की विधानसभा क्षेत्रवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
अतिथि शिक्षकों द्वारा अन्य विषयों के अध्यापन कार्य कराना
[स्कूल शिक्षा]
165. ( क्र. 3176 ) श्री बहादुर सिंह चौहान : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रकरण क्रमांक 2052 दिनांक 09.12.2016 के अनुसार प्रदेश के माध्यमिक विद्यालयों में विज्ञान एवं अंग्रेजी विषय का अध्यापन कार्य विषय विशेषज्ञ अतिथि शिक्षक से ही कराने संबंधी कोई आदेश शासन ने जारी नहीं किया है तो फिर उज्जैन जिले में विषय विशेषज्ञ अतिथि शिक्षक द्वारा ही अध्यापन कराने पर जोर क्यों दिया जा रहा है? (ख) क्या इस संबंध में अगले सत्र के लिए स्पष्ट दिशा-निर्देश जारी कर दिए गए है यदि नहीं, तो कब तक कर दिये जायेंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( कुँवर विजय शाह ) : (क) प्रश्नांश में वर्णित प्रकरण क्रमांक प्रकरण न होकर पूर्व विधान सभा तारांकित प्रश्न क्रमांक 2052 दिनांक 09.12.16 है। इस क्रम में शासन आदेश क्रमांक एफ-44-15/2010/20-2 दिनांक 30.06.16 में विषयमान से शिक्षकों की व्यवस्था अपेक्षित है। (ख) प्रश्नांश 'क' के उत्तर में दर्शित आदेश पूर्व से ही स्पष्ट हैं। शासन द्वारा पुन: एकीकृत आदेश दिनांक 09/11/16 जारी किया गया है।
धार जिले के दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों की जानकारी
[आदिम जाति कल्याण]
166. ( क्र. 3179 ) श्री सुरेन्द्र सिंह बघेल : क्या आदिम जाति कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) धार जिले में विभाग में कितने दैनिक वेतन भोगी कार्यरत है विधानसभा क्षेत्रवार बतावें? (ख) प्रश्न दिनांक तक जिन कर्मचारियों का वेतन भुगतान लंबित है उन्हें कब तक भुगतान कर दिया जायेगा?
आदिम जाति कल्याण मंत्री ( श्री ज्ञान सिंह ) : (क) धार जिले में विभाग में विधान सभावार कार्यरत दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों की संख्या निम्नानुसार है:-
विधान सभा का नाम |
कार्यरत दैनिक वेतन भोगी कर्मचारियों की संख्या |
धार |
107 |
सरदारपुर |
67 |
गंधवानी |
123 |
मनावर |
95 |
कुक्षी |
238 |
धरमपुरी |
101 |
बदनावर |
17 |
(ख) मजदूरी मद में बजट उपलब्धता न होने से राशि रूपये 1103.86 लाख के पुनर्विनियोजन की कार्यवाही की जा रही हैं। स्वीकृति प्राप्त होने पर लंबित वेतन भुगतान किया जा सकेगा।
फार्मासिस्ट की समस्याओं का निराकरण
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
167. ( क्र. 3180 ) श्री सुरेन्द्र सिंह बघेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या अवर सचिव (म.प्र. शासन) लोक स्वास्थ्य परिवार कल्याण विभाग द्वारा पत्र क्रमांक 4180/3932/2016/17/मेडि-1 दिनांक 24.12.2016 द्वारा आयुक्त स्वास्थ्य म.प्र. को प्रदेश के फार्मासिस्टों की समस्याओं के निराकरण विषयक पत्र भेजकर आठ बिन्दुओं पर यथाशीघ्र कार्यवाही सुनिश्चित की जाकर अवगत कराने के निर्देश दिए गए है? (ख) उपरोक्त पत्र पर आयुक्त स्वास्थ्य सेवाएं म.प्र. द्वारा कब-कब क्या-क्या कार्यवाही की गई, किन-किन बिन्दुओं पर समुचित प्रस्ताव तैयार कर शासन को भेजा गया है किन-किन बिन्दुओं पर कार्यवाही की जा रही है?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) फार्मासिस्टों की समस्याओं से संबंधित ज्ञापन के बिन्दुओं पर तथ्यात्मक टीप विभाग में दिनांक 15/02/2017 को प्राप्त हुई है जो परीक्षणाधीन है।
खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा लापरवाही व मनमानी करना
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
168. ( क्र. 3182 ) श्री बाला बच्चन : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) खरगोन, बड़वानी, खंडवा, छिन्दवाड़ा के खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा वर्ष 2015-16 में कितने नमूने जाँच हेतु लिये गये? लीगल व सर्विलेंस की पृथक-पृथक जानकारी जिलेवार देवें? (ख) क्या सभी खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा निर्धारित लक्ष्य अनुरूप नमूने लिये गये हैं? यदि नहीं, तो संबंधितों पर क्या कार्यवाही की जावेगी? (ग) क्या खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा स्थानीय निर्माताओं की तुलना में ब्रांडेड कंपनियों के अधिक नमूने लिये गये हैं? यदि हाँ, तो क्यों? ऐसी मनमानी करने वाले अधिकारियों पर शासन कब तक कार्यवाही करेगा?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ, शेष प्रश्नांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम, 2006, विनियम, 2011 के अनुरूप नमूने लेने की कार्यवाही की गई है। शेष प्रश्नांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
अमानक खाद्य पदार्थों पर कार्यवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
169. ( क्र. 3183 ) श्री बाला बच्चन : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश के खाद्य विभाग द्वारा नामी (ब्रांडेड) कंपनियों के नमूने जाँच हेतु नहीं लिये जाते हैं या कब लिये जाते है? यदि हाँ, तो इसका कारण बतावें? (ख) यदि नहीं, तो कृति तेल, विमल पान मसाला, पुष्प मसाले नीलम, धामेजा मसाले मालवा घी, तलाटी, त्रिशूल आटा बेलन आटा एवं इन्हीं श्रेणियों के कितने ब्रांडों के नमूने कब-कब लिये गये दिनांक 01.01.2016 से 31.12.2016 तक के संदर्भ में बतावें? (ग) इनमें कितने अमानक, मिथ्याछाप, नकली प्रकरण कब-कब बनाये गये एवं इन पर क्या कार्यवाही की गई सभी प्रकरणों की अद्यतन स्थिति बतावें? (घ) प्रश्न (ख) व (ग) की जानकारी जिलावार माहवार नाम सहित दिनांकवार देवें?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जी नहीं। समस्त प्रकार के लूज़ एवं पैक खाद्य पदार्थों के नमूने जाँच हेतु लिए जाते हैं। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) से (घ) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
म.प्र. नर्सिंग काउसिंल की शिकायत
[चिकित्सा शिक्षा]
170. ( क्र. 3190 ) श्री रमेश पटेल : क्या राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विगत 03 वर्षों में रजिस्ट्रार म.प्र. नर्सिंग कौंसिल के विरूद्ध कितनी शिकायतें दर्ज कराई गईं? (ख) उपरोक्तानुसार प्राप्त शिकायतों पर क्या कार्यवाही की गई? शिकायत की विषयवस्तु क्या-क्या हैं? (ग) क्या रजिस्ट्रार नर्सिंग काउसिंलिग द्वारा शासन/विभाग के कुछ भ्रष्ट अधिकारियों को तरह-तरह से उपकृत करने के कारण प्रश्न दिनांक तक उक्त रजिस्टार को नहीं हटाया जाकर पारदर्शी जाँच नहीं की गई, जिसके लिये कौन अधिकारी जबावदेह है? (घ) क्या शासन म.प्र. नर्सिंग कौंसिंल की रजिस्ट्रार श्रीमती अंगुरी सिंह को तत्काल पद से हटाते हुए इनके विरूद्ध प्राप्त शिकायतों की पारदर्शी जाँच करायेगा? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्यमंत्री, चिकित्सा शिक्षा ( एडवोकेट शरद जैन ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) एवं (घ) उत्तरांश ‘‘क’’ एवं ‘‘ख’’ के परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होते।
स्टेट फार्मासिस्ट की समस्याएं
[लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण]
171. ( क्र. 3192 ) श्री रमेश पटेल : क्या लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विगत 2 वर्षों में स्वास्थ्य विभाग को स्टेट फार्मासिस्ट एसोसिएशन म.प्र. का किन-किन विषयक कौन-कौन से पत्र कब-कब किस-किस माध्यम से प्राप्त हुए? (ख) उपरोक्तानुसार प्राप्त अभ्यावेदनों/पत्रों पर संबंधित द्वारा कब-कब, क्या-क्या कार्यवाही की गई? विस्तृत विवरण देवें! (ग) उपरोक्तानुसार प्राप्त पत्रों के विषय वस्तु क्या है एवं किन-किन विषयों/बिन्दुओं का निराकरण किया जा चुका है एवं किन-किन बिन्दुओं का निराकरण किया जाना शेष है? कार्यवाही किस स्तर पर है? किन-किन बिन्दुओं का निराकरण कब तक किया जावेगा? (घ) उपरोक्त पत्रों पर किस स्तर पर देरी हुई है? इसके लिए कौन अधिकारी/कर्मचारी जवाबदेह है एवं जवाबदेह अधिकारी एवं कर्मचारियों पर कब तक समुचित कार्यवाही की जावेगी?
लोक स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्री ( श्री रुस्तम सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) फार्मासिस्टों की समस्याओं से संबंधित ज्ञापन के बिन्दुओं पर टीप संबंधित शाखाओ/कार्यालयों से प्राप्त किये गये। तत्पश्चात् फार्मासिस्टों की समस्याओं से संबंधित ज्ञापन के बिन्दुओं पर तथ्यात्मक टीप के साथ कार्यवाही हेतु नस्ती दिनांक 15/02/2017 को प्राप्त हुई हैं] जो परीक्षणाधीन है। (ग) प्राप्त पत्रों की विषयवस्तु की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। उत्तरांश (ख) में उल्लेखित अनुसार कार्यवाही प्रचलित है। निश्चित समय-सीमा बताई जाना संभव नहीं है। (घ) उत्तरांश (ख) के अनुक्रम में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।