मध्यप्रदेश विधान सभा
प्रश्नोत्तर-सूची
फरवरी-मार्च
2017 सत्र
गुरूवार, दिनांक 23 मार्च 2017
भाग-1
तारांकित
प्रश्नोत्तर
पुल-निर्माण
की स्वीकृति
[लोक निर्माण]
1. ( *क्र. 1618 ) कुँवर हजारीलाल दांगी : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता के प्रश्न संख्या 56, (क्रमांक 503) दिनांक 05 दिसम्बर, 2016 के उत्तर की कंडिका (ख) में माननीय विभागीय मंत्री महोदय द्वारा बताया गया था कि खिलचीपुर व्हाया सेमलीकलां से रामगढ़ मार्ग पर ग्राम बटेडिया में छापी नदी पर, ग्राम लिम्बोदा से कुंडालिया मार्ग पर तथा ग्राम काशीखेड़ा में छापी नदी पर पुल निर्माण कार्य वित्तीय संसाधनों की सीमित उपलब्धता के कारण स्वीकृत नहीं किया जा सका है? यदि हाँ, तो क्या वर्तमान में उक्त पुलों के निर्माण हेतु विभाग द्वारा कोई कार्यवाही की गई है? यदि हाँ, तो क्या? यदि नहीं, तो क्यों? (ख) उपरोक्तानुसार क्या शासन उक्त स्थानों पर पुल निर्माण कार्य का आगामी मुख्य बजट में प्रावधान करेगा?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। जी हाँ। तीनों पुल कार्यों के डी.पी.आर. तैयार कर बजट में सम्मिलित करने की कार्यवाही की गई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) प्रश्न में वांछित अनुसार बजट में सम्मिलित करने की कार्यवाही की गई है।
चंबल नदी पर वृहद डेम का निर्माण
[जल संसाधन]
2. ( *क्र. 5598 ) श्री दिलीप सिंह शेखावत : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र के नागदा शहर में ग्रेसिम उद्योग द्वारा चम्बल नदी पर क्रमबद्ध 4 स्टॉप डेमों का निर्माण कराया गया था? क्या वर्तमान में ग्रेसिम, केमिकल डिवीजन, लेंसेक्स उद्योग, नागदा नगर, खाचरौद नगर एवं रेल्वे की आवश्यकताएं काफी बढ़ जाने के कारण इन डेमों से पूर्ति नहीं हो पा रही है, इस कारण ग्रीष्मकाल में उद्योग बन्द हो जाते हैं? साथ ही इन छोटे डेमों में पर्याप्त जल नहीं होने से किसानों को सिंचाई भी नहीं करने दी जाती है, जिससे किसानों की फसलें भी प्रभावित होती हैं? (ख) क्या उपरोक्त समस्याओं के निवारण के लिये चम्बल नदी पर एक वृहद डेम के निर्माण की अत्यंत आवश्यकता है? (ग) वृहद डेम निर्माण करने के लिये शासन द्वारा क्या योजना बनाई जा रही है? यदि योजना नहीं बनाई गयी है तो कब तक बना ली जावेगी?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) जी हाँ। (ख) एवं (ग) चंबल नदी पर कोई वृहद परियोजना प्रस्तावित नहीं है। उज्जैन जिले के नागदा खाचरौद क्षेत्र में सिंचाई, पेयजल एवं औद्योगिक उपयोग के लिये जल कमी की पूर्ति हेतु चंबल नदी की सहायक बागेड़ी नदी पर नागदा नगर से 18 कि.मी. अपस्ट्रीम में चंदवासला परियोजना की साध्यता स्वीकृति प्रदान कर डी.पी.आर. बनाने के निर्देश दिये गये हैं।
सी.आर.एफ. मद से निर्मित सड़कें
[लोक निर्माण]
3. ( *क्र. 5184 ) श्री ओमकार सिंह मरकाम : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भारत सरकार के सी.आर.एफ. मद से लोक निर्माण विभाग को विगत 3 वर्षों में कुल कितनी राशि प्राप्त हुई? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार प्राप्त राशि से डिंडौरी जिले में (क) अवधि में विभाग अन्तर्गत किन मार्गों का निर्माण कार्य कब प्रारम्भ हुआ? कार्य कब पूर्ण हुआ? कार्य पर कितना व्यय हुआ? (ग) सी.आर.एफ. के मद से लोक निर्माण विभाग द्वारा निर्मित कौन-कौन सी सड़कों की पुन: मरम्मत व निर्माण किया जा रहा है? कितनी राशि स्वीकृत की गयी तथा स्वीकृत राशि में कितनी राशि व्यय की गयी?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) वर्ष 2014-15 में रूपये 180.99 करोड़, वर्ष 2015-16 में रूपये 209.69 करोड़ तथा वर्ष 2016-17 में रूपये 128.80 करोड़। (ख) विगत तीन वर्षों में डिण्डोरी संभाग के अंतर्गत सी.आर.एफ. मद में कोई कार्य स्वीकृत नहीं है, अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
सहकारी बैंकों से राशि आहरण की सीमा
[सहकारिता]
4. ( *क्र. 5374 ) श्री सुखेन्द्र सिंह : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश के सहकारिता विभाग द्वारा प्रदेश के सभी जिलों में जिला सहकारी बैंक संचालित किये गये हैं? यदि हाँ, तो नोटबंदी में उपभोक्ताओं को राशि आहरण के प्रतिबंध की सीमा सभी बैंकों के समान ही लागू की गई है? (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में क्या जिला सहकारी बैंक की शाखाएं ब्लॉक मुख्यालयों पर संचालित हैं, जहां पर राशि का लेन-देन किया जाता है? यदि हाँ, तो क्या सरकारी बैंक की शाखाएं बचत बैंक के रूप में सहकारी समितियों के माध्यम से ग्रामों में संचालित हैं? (ग) प्रश्नांश (क) (ख) के प्रकाश में ब्लॉक मुख्यालय पर स्थित सहकारी बैंक से बचत खाते हेतु प्रश्न दिनांक के समय 24 हजार रूपये हफ्ता के आहरण हेतु लिमिट निर्धारित है? यदि हाँ, तो क्या इन बचत बैंकों में बहुत सारे ग्रामीण उपभोक्ताओं के खाते खुले हुए हैं? यदि हाँ, तो प्रत्येक खातेधारी को अपने खाते से आहरण हेतु 24 हजार रूपये प्रति हफ्ता आहरण सीमा निर्धारित है? (घ) प्रश्नांश (क) (ख) (ग) के प्रकाश में सहकारी समिति बचत बैंक किस प्रकार से सभी खातेदारों को प्राप्त 24 हजार में वितरण किया जा रहा है? स्पष्ट करें। क्या ग्रामीण क्षेत्र के उपभोक्ताओं को 24 हजार आहरण की सीमा से वंचित रखा जा रहा है? इसके लिये कौन दोषी हैं? क्या सहकारी समिति बचत बैंक को भी प्रत्येक उपभोक्ता को आहरण सीमा 24 हजार रूपये हफ्ता की पूर्ति कराई जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक समय-सीमा बतावें? यदि नहीं, तो कारण स्पष्ट करें? (ड.) प्रश्नांश (क) (ख) (ग) एवं (घ) के प्रकाश में ग्रामीण क्षेत्रों के दूर-दराज इलाकों में जहां सहकारी बचत बैंक संचालित हैं, वहां उन्हें प्रतिदिन एवं शादी ब्याह हेतु पैसा सीमा के अंदर भी प्राप्त नहीं हो रहा है? इसके लिये कौन दोषी है? दोषी के खिलाफ क्या कार्यवाही की जावेगी? नहीं की जावेगी तो क्यों? कारण स्पष्ट करें। उपभोक्ताओं की परेशानी के लिये कौन जिम्मेदार है? स्पष्ट करें।
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) प्रदेश के 51 जिलों में 38 जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक संचालित हैं। जी हाँ। (ख) जी हाँ, ब्लॉक मुख्यालय के अतिरिक्त अन्य स्थानों पर भी संचालित हो रही हैं। जी नहीं, जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक की शाखाएं बचत बैंक के रूप में समितियों के माध्यम से ग्रामों से संचालित नहीं हैं। (ग) जिला सहकारी केन्द्रीय बैंकों की समस्त शाखाओं के लिये भारतीय रिजर्व बैंक से निर्धारित प्रतिदिन की आहरण सीमा रूपये 24 हजार निर्धारित थी, परन्तु बचत बैंकों पर बीआर एक्ट लागू नहीं होने से उनके खातेदारों को खाते से आहरण की कोई सीमा निर्धारित नहीं थी। जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक से प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियों के खाते में प्रति सप्ताह रूपये 24 हजार की आहरण सीमा लागू होने के कारण बचत बैंक के ग्राहकों को मांग अनुरूप राशि उपलब्ध नहीं कराई जा सकी। (घ) उत्तरांश (ग) अनुसार प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियों के बचत बैंक के सभी खातेदारों को राशि रूपये 24 हजार प्रति सप्ताह वितरण करने में समर्थ नहीं थी, क्योंकि जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक से प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियों के खाते में प्रति सप्ताह रूपये 24 हजार की आहरण सीमा लागू थी। भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा वर्तमान में रूपये 24 हजार प्रति सप्ताह आहरण की सीमा के स्थान पर रूपये 50 हजार प्रति सप्ताह कर दी गई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ड.) जी हाँ, जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक से प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियों के खाते में प्रति सप्ताह रूपये 24 हजार एवं वर्तमान में रूपये 50 हजार की आहरण सीमा लागू होने के कारण बचत बैंक के ग्राहकों को मांग अनुरूप राशि उपलब्ध नहीं कराई जा सकी। अतः किसी को दोषी नहीं ठहराया जा सकता है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विधायक निधि से कराए गए कार्य में अनियमितता
[लोक निर्माण]
5. ( *क्र. 6914 ) श्री संदीप श्री प्रसाद जायसवाल : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधायक निधि से शा.प्रा.शाला खैबरलाइन-कटनी में प्रश्नकर्ता के पत्र दिनांक 23.03.2015 द्वारा 10.00 लाख से नवीन भवन निर्माण्ा हेतु एवं 23.10.2015 द्वारा 45 हजार राशि डिसमेंटलिंग कार्य हेतु प्रदान की गई थी और विभाग द्वारा राशि 8.93 लाख से भवन एवं 1.07 का विद्युतीकरण कार्य का प्राक्कलन तैयार किया गया था? यदि हाँ, तो प्राक्कलन का विवरण और किये गये कार्य के कार्यादेश, माप पुस्तिका (एम.बी.) एवं किये गये भुगतान के देयक उपलब्ध करायें? (ख) क्या प्रश्नांश (क) के तहत प्रदत्त 10.45 लाख की राशि में से विभाग को 7.53 लाख की राशि ही सर्वर के माध्यम से प्राप्त हुई थी? यदि हाँ, तो कारण बतायें? (ग) क्या उपरोक्त 7.52 लाख की राशि से ही भवन निर्माण कार्य विभाग द्वारा करा लिया गया? यदि हाँ, तो प्राक्कलन में क्या परिवर्तन किये गये? किये गये परिवर्तन से प्रश्नकर्ता विधायक को क्यों नहीं अवगत कराया और विधायक विकास निधि से अनुशंसित किये गये कार्यों को कराये जाने एवं सदस्य विधानसभा को अवगत कराने संबंधी शासनादेश क्या हैं? (घ) प्रश्नांश (क) से (घ) के तहत अनुशंसित कार्य के निर्माण एवं राशि के उपयोग की कार्यवाही किस प्रकार सही है? राशि कम प्राप्त होने की जानकारी प्रदाय न करने, विकास निधि की पूर्ण राशि का उपयोग न करने, निर्माण अपूर्ण रहने, राशि लेप्स होने का कौन-कौन जिम्मेदार है? क्या इस अनियमितता पर कार्यवाही की जायेगी? यदि हाँ, तो क्या एवं कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) प्राक्कलन अनुसार प्रदाय राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। प्रश्न में चाही शेष जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 1, 2, 3, 4 अनुसार है। (ख) किये गये कार्य के अनुसार राशि 7.53 लाख का आहरण किया गया है। (ग) जी नहीं। भवन निर्माण में सिविल कार्य पूर्ण, विद्युतीकरण का कार्य प्रगति पर, प्राक्कलन में कोई परिवर्तन नहीं। अत: शेष जानकारी का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) प्रश्नांश (ग) के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में कार्यवाही आवश्यक नहीं।
मंदसौर-नीमच जिले में संचालित ए.डी.जे. कोर्ट
[विधि और विधायी कार्य]
6. ( *क्र. 5923 ) श्री हरदीप सिंह डंग : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मंदसौर-नीमच जिले में कितने अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायालय ए.डी.जे. कोर्ट संचालित हैं एवं स्थापना वर्ष की जानकारी देवें? (ख) उपरोक्त संचालित अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायालय ए.डी.जे. कोर्ट में आवश्यक मूलभूत सुविधाएं तथा न्यायालय भवन, न्यायाधीश आवास, गृह जेल/उपजेल स्टॉफ के पदों की पूर्ति सब सुविधा है या कौन-कौन सी कमी है? जानकारी देवें। (ग) उपरोक्त मंदसौर-नीमच जिले में प्रत्येक ए.डी.जे. कोर्ट के अधिकार क्षेत्र में कितने-कितने गांव हैं तथा ए.डी.जे. कोर्ट से सबसे अधिक दूरी पर कौन सा गांव स्थित है? गांव का नाम व दूरी सहित जानकारी देवें। (घ) सीतामऊ न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी कोर्ट में कितने गांव सम्मिलित हैं, सबसे अधिक दूरी वाला गांव कौन सा है? गांव का नाम व दूरी सहित जानकारी देवें।
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
कृषि यंत्रों पर सब्सिडी
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
7. ( *क्र. 5897 ) श्रीमती झूमा सोलंकी : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या किसानों को ड्रिप/स्प्रिंकलर/मोटर पंप क्रय करने पर शासन द्वारा सब्सिडी देने का प्रावधान है? यदि हाँ, तो वह कितनी राशि है? पृथक-पृथक बतायें। सब्सिडी किसके खाते में जमा होगी? किसान या सप्लाय करने वाली कंपनी? इस संबंध में जारी निर्देशों की प्रतिलिपी उपलब्ध करावें। (ख) किसानों द्वारा कृषक अंश जमा करने के उपरान्त किसान स्वयं अपनी इच्छा से ड्रिप/स्प्रिंकलर/मोटर पंप क्रय करना चाहे तो किसानों के सीधे बैंक खाते में सब्सिडी की राशि जमा हो सकती है? यदि हाँ, तो नियमावली की प्रतिलिपी उपलब्ध करावें? नहीं तो क्यों? किसानों को कंपनी द्वारा ड्रिप/स्प्रिंकलर/मोटर पंप क्रय करने पर कितनी मात्रा में सामग्री एवं कौन सी गुणवत्ता की उपलब्ध करायी जाती है?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जी हाँ। योजनावार सब्सिडी देने के पृथक पृथक प्रावधान की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। यंत्रों पर किसानों द्वारा स्वयं अपनी इच्छा से शासन द्वारा पंजीकृत अधिकृत विक्रेताओं के माध्यम से क्रय करने की स्थिति में हितग्राही को देय अनुदान उसके बैंक खाते में सीधे (डी.बी.टी.) जमा किया जावेगा। मध्यप्रदेश राज्य कृषि उद्योग विकास निगम/मध्यप्रदेश राज्य सहकारी विपणन संघ मर्यादित से सामग्री क्रय करने की स्थिति में यदि हितग्राही द्वारा केवल कृषक अंश की राशि जमा कर सामग्री क्रय की गई है तो अनुदान राशि का भुगतान संबंधित संस्था के बैंक खाते में सीधा किया जावेगा। इस संबंध में जारी निर्देशों की प्रतिलिपि पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ख) जी हाँ। निर्देशों/नियमावली की प्रतिलिपि पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार किसानों द्वारा स्वयं अपनी इच्छा से शासन द्वारा पंजीकृत अधिकृत विक्रेताओं के माध्यम से क्रय करने की स्थिति में हितग्राही को देय अनुदान उसके बैंक खाते में सीधे (डी.बी.टी.) जमा किया जावेगा। मध्यप्रदेश राज्य कृषि उद्योग विकास निगम/मध्यप्रदेश राज्य सहकारी विपणन संघ मर्यादित से सामग्री क्रय करने की स्थिति में यदि हितग्राही द्वारा केवल कृषक अंश की राशि जमा कर सामग्री क्रय की गई है तो अनुदान राशि का भुगतान संबंधित संस्था के बैंक खाते में सीधा किया जावेगा। किसानों को कंपनी द्वारा ड्रिप/स्प्रिंकलर/मोटर पंप क्रय करने पर संबंधित योजना के प्रचलित निर्देशों में उल्लेखित मात्रा में सामग्री आई.एस.आई. मार्क एवं निर्धारित गुणवत्ता की उपलब्ध कराई जाती है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है।
लघु एवं मध्यम सिंचाई परियोजना का संचालन
[जल संसाधन]
8. ( *क्र. 2076 ) श्री कुंवर सिंह टेकाम : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सीधी/सिंगरौली जिलांतर्गत विधानसभा क्षेत्र धौहनी में कितनी लघु एवं मध्यम सिंचाई योजनायें संचालित हैं? सूची उपलब्ध करायें। (ख) क्या प्रश्नांश (क) के संदर्भ में बकिया बांध, कोड़ार बांध एवं जमधर बांध तथा वरचर बांध की मुख्य नहरों के पक्कीकरण आर.आर.आर. के माध्यम से कराये जाने का प्रस्ताव है? यदि हाँ, तो उसकी स्वीकृति कब तक प्रदान कर निर्माण कार्य कराया जायेगा? यदि नहीं, तो आर.आर.आर. के तहत क्या शामिल किया जाएगा? (ग) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में लघु सिंचाई योजनाओं से संबंधित जीर्णोद्धार हेतु कितने प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं? प्रस्तावित कार्यों की स्वीकृति कब तक प्रदान की जायेगी? (घ) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में जीर्ण-शीर्ण माइनर नहरों का मरम्मत कार्य कराये जाने की क्या योजना है? क्या मरम्मत कार्य कराया जायेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश में उल्लेखित परियोजनाओं में नहरों के पक्कीकरण करने का कोई प्रस्ताव स्वीकृति हेतु विचाराधीन नहीं है। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होते हैं। (ग) एवं (घ) पूर्व में स्वीकृत जीर्णोद्धार कार्यों की स्थिति संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। लघु सिंचाई परियोजनाओं के जीर्णोद्धार कराने का कोई नवीन प्रस्ताव स्वीकृति हेतु विचाराधीन नहीं होने से शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होते हैं।
वेयर हाउसिंग में कराये गये कार्य
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
9. ( *क्र. 6238 ) श्री शंकर लाल तिवारी : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सागर जिले की मंडी/उपमंडी प्रांगणों में बुन्देलखण्ड परियोजना के तहत वेयर हाउसिंग कॉरपोरेशन में अधिकारियों के द्वारा निर्माण कार्य कराया गया है? (ख) क्या वेयर हाउसिंग कॉरपोरेशन के इंजीनियरों द्वारा मण्डी/उपमंडी में घटिया निर्माण कार्य कराए गए हैं एवं इस संबंध में शिकायतें प्राप्त हुई हैं? (ग) मंडी/उपमंडी प्रांगणों में घटिया निर्माण कार्य होने के कारण किन-किन मंडियों द्वारा आज दिनांक तक निर्मित कार्यों का आधिपत्य नहीं लिया गया है? (घ) घटिया निर्माण कराने वाले तकनीकी अधिकारियों के विरूद्ध आज दिनांक तक कार्यवाही क्यों नहीं की गई? यदि की जावेगी तो कब तक?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। जी हाँ, शिकायतें प्राप्त हुई हैं। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) उत्तरांश (ख) के अनुक्रम में निर्माण कार्यों में गुणवत्ता संबंधी जाँच मुख्य तकनीकी परीक्षक संगठन द्वारा की जा रही है। जाँच प्रतिवेदन प्राप्त होने के उपरान्त गुण-दोष के आधार पर संबंधित संस्था द्वारा कार्यवाही की जावेगी।
आई.सी.डी.पी. योजना अंतर्गत गोदाम निर्माण
[सहकारिता]
10. ( *क्र. 5860 ) श्री संजय उइके : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बालाघाट जिले में आई.सी.डी.पी. योजनान्तर्गत वित्तीय वर्ष 2011-12 से प्रश्न दिनांक तक गोदाम निर्माण हेतु भूमि आवंटन के लिए किन-किन समितियों से प्रस्ताव, कलेक्टर बालाघाट के समक्ष आये हैं? (ख) कौन-कौन सी समितियों को भूमि आवंटित कर गोदाम निर्माण हेतु कितनी राशि कब प्रदान की गई है? (ग) भूमि आवंटन में घास एवं छोटे झाड़ के जंगल मद की भूमि में गोदाम निर्माण में अवरोध उत्पन्न होने से किन-किन समितियों को भूमि आवंटन नहीं किया गया है? समितिवार जानकारी देवें। (घ) क्या शासन स्तर पर उक्त मद परिवर्तन कर गोदाम निर्माण हेतु विभाग द्वारा प्रयास किया जा रहा है?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''एक'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''दो'' अनुसार है। (ग) 11 समितियों को। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''तीन'' अनुसार है। (घ) वन संरक्षण अधिनियम 1980 के अंतर्गत आवश्यक कार्यवाही प्रावधानित है।
मझगवां सघन बस्ती में राष्ट्रीय राजमार्ग का निर्माण
[लोक निर्माण]
11. ( *क्र. 3265 ) श्री मोती कश्यप : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वर्ष 2015-16 की अवधि में कटनी-अनूपपुर राष्ट्रीय राजमार्ग 78 के अंतर्गत तहसील बड़वारा के ग्राम मझगवां में बायपास निर्माण हेतु कृषकों के द्वारा मा. मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय जबलपुर में प्रस्तुत किये गये किसी वाद और पुनरीक्षण याचिका पर किसके पक्ष में किन्हीं दिनांकों को कोई निर्णय दिये गये हैं? (ख) क्या कलेक्टर कटनी के परामर्श पर निर्माण एजेन्सी द्वारा मझगवां के मध्य से जाने वाले सकरे मार्ग पर सैकड़ों वर्ष से निवास कर रहे ग्रामीणों के आवासों को ध्वस्त कर वर्तमान प्रचलित मार्ग का निर्माण किया जाना वैधानिक है? (ग) क्या विभाग द्वारा जनविरोध के विध्वंस को बचाते हुए दायीं दिशा की शासकीय व बंजर पड़ी कृषकों की भूमि से बायपास का निर्माण कराकर ग्रामीणों को राहत प्रदान की जावेगी?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ख) जी हाँ। ग्राम मझगवां बायपास में भू-अर्जन प्रक्रिया पूर्ण न हो पाने के कारण व परियोजना को सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय, नई दिल्ली, भारत सरकार द्वारा निर्धारित अनुबंधानुसार समय-सीमा में पूर्ण करने हेतु अथॉरिटी इंजीनियर के अभिमत पर विद्यमान मार्ग का निर्माण मझगवां के मध्य से विद्यमान मार्ग पर कार्य किया जा रहा है। विद्यमान मार्ग में पर्याप्त चौड़ाई उपलब्ध है व विभाग द्वारा कुछ ही जगहों पर शासकीय भूमि पर अतिक्रमण तोड़कर निर्माण संभव होगा। (ग) जी नहीं। मार्ग निर्माण विद्यमान सड़क सीमा में किया जा रहा है अतः विरोध की कोई स्थिति नहीं है।
जबलपुर-भोपाल सड़क मार्ग का रख-रखाव
[लोक निर्माण]
12. ( *क्र. 6282 ) श्रीमती प्रतिभा सिंह : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जबलपुर जिले के अंतर्गत आने वाले जबलपुर-भोपाल (NH-12) मार्ग के जबलपुर से प्रश्नकर्ता के गाँव बेलखेड़ा तक विगत एक वर्ष में सुधार, रख-रखाव के क्या-क्या कार्य कितनी-कितनी राशि से किन-किन ठेकेदारों से कराये गये? (ख) क्या प्रश्नांश (क) रोड का एक वर्ष से सुधार कार्य नहीं होने के कारण सड़क गड्ढों में तब्दील हो गयी है? मात्र 50 कि.मी. यात्रा में उक्त रोड पर 3 घंटे का समय लग रहा है? क्या शासन उक्त जर्जर मार्ग का सुधार शीघ्र कराने के निर्देश MPRDC को देगा? यदि हाँ, तो कब तक?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। जी नहीं। मार्ग की मरम्मत म.प्र. रोड़ डेव्हलपमेंट कार्पो.लि. द्वारा जारी है। जबलपुर से हिरन नदी तक विद्यमान मार्ग पर चारलेन में उन्नयन हेतु केन्द्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय नई दिल्ली द्वारा स्वीकृति प्रदान की गई है।
मुख्यमंत्री की घोषणा का क्रियान्वयन
[जल संसाधन]
13. ( *क्र. 5160 ) श्री रणजीतसिंह गुणवान : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या आष्टा विधान सभा क्षेत्र में माननीय मुख्यमंत्री जी ने घोषणा की थी कि झीकडी मनीपुरा तालाब की पाल बढ़वाई जायेगी? (ख) यदि हाँ, तो अभी तक घोषणा पर कार्य क्यों नहीं हुआ? (ग) कब तक कार्य प्रारम्भ कर दिया जायेगा? इसके लिये कौन जिम्मेदार है?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) से (ग) जी हाँ। मान. मुख्यमंत्री जी द्वारा दिनांक 25.01.2016 को की गई घोषणा क्र. बी-1558 है। घोषणा के परिप्रेक्ष्य में सर्वेक्षण कार्य किया गया। प्रस्ताव परीक्षणाधीन है।
घूघस सिघौरा नदी पर पुल निर्माण
[लोक निर्माण]
14. ( *क्र. 7073 ) श्री सत्यपाल सिंह सिकरवार : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सुमावली विधानसभा क्षेत्र मुरैना में घूघस-सिघौरा नदी पर पुल निर्माण कार्य क्यों बंद किया गया है? फरवरी 2017 की स्थिति में जानकारी दी जावे। (ख) उक्त पुल निर्माण की स्वीकृत राशि कितनी थी? कितनी राशि अभी तक खर्च की जा चुकी है? कौन सी कम्पनी कार्य कर रही है? कितना प्रतिशत निर्माण कार्य किया जा चुका है? (ग) अभी तक कितना कार्य कराया जा चुका है? क्या उक्त पुल के निर्माण की शासन द्वारा वैकल्पिक योजना बनाई गई है? यदि हाँ, तो क्या? यदि नहीं, तो क्यों नहीं?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) निर्माणाधीन पुल के डाउनस्ट्रीम में जल संसाधन विभाग द्वारा बैराज का निर्माण स्वीकृत होने के कारण पुल डूब क्षेत्र में आने से। वर्तमान में पुल निर्माण कार्य बंद है। (ख) रू. 645.85 लाख। रू. 107.27 लाख। मेसर्स चम्बल डेवलपर्स ग्वालियर। लगभग 18 प्रतिशत। (ग) लगभग 18 प्रतिशत कार्य पूर्ण। जी नहीं। प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। वर्तमान में पुल एवं पहुंच मार्ग के निर्माण हेतु वैकल्पिक कार्य योजना तैयार करने की कार्यवाही संबंधित विभागों के संयुक्त समन्वय से की जावेगी।
बांध सुजारा परियोजना से विस्थापितों का पुनर्वास
[जल संसाधन]
15. ( *क्र. 5209 ) श्री के. के. श्रीवास्तव : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) टीकमगढ़ जिले में बांध सुजारा बांध परियोजना में जिन गाँवों की जमीन डूब क्षेत्र में प्रभावित हुई उन प्रभावितों को जहां पुनर्वासित किया जा रहा है, वहाँ मूलभूत अधोसरंचना के अंतर्गत क्या-क्या निर्माण कार्य हुये हैं और अब तक क्या-क्या किये जा चुके हैं? अलग-अलग बसाहटों की स्पष्ट जानकारी दें। (ख) नवीन बसाहटों में कब तक निर्धारित मापदण्डों के तहत निर्माण कार्य पूर्ण कर लिया जावेगा? (ग) शासन के निर्धारित मापदण्डों के अधीन निर्माण कार्य कब तक पूर्ण कर लिया जाना चाहिये? अवधि बताये तथा पुनर्वास की शर्तों के अधीन प्रश्न दिनांक तक निर्माण न कर पाने वालों के विरूद्ध क्या कार्यवाही निरूपित की गई है? यदि नहीं, तो क्यों?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) विस्थापित परिवारों के लिये टीकमगढ़ जिले में 02 पुनर्वास कॉलोनी, नवीन पुरैनिया एवं नवीन दरगुंआ बनाई जा रही है। नवीन पुरैनिया कॉलोनी में प्राथमिक शाला भवन, माध्यमिक शाला भवन, सामुदायिक भवन, आंगनवाड़ी भवन, मन्दिर, शान्तिधाम, पेयजल हेतु पानी की टंकियाँ, डब्ल्यू.बी.एम. सड़क, जल निकासी हेतु नालियाँ, विद्युत व्यवस्था आदि निर्माण कार्य 95 प्रतिशत तक पूर्ण कराये जा चुके हैं एवं नवीन कॉलोनी दरगुंआ में प्राथमिक शाला भवन, सामुदायिक भवन, आंगनवाड़ी भवन, मन्दिर, शान्तिधाम, पेयजल हेतु पानी की टंकियाँ, डब्ल्यू.बी.एम. सड़क, जल निकासी हेतु नालियाँ आदि के कार्य 50 प्रतिशत पूर्ण होकर प्रगतिरत हैं। (ख) नवीन पुरैनिया में मार्च 2017 तक तथा नवीन दरगुंआ में मई 2017 तक निर्माण कार्य पूर्ण होना संभावित है। (ग) इस वर्ष बाँध में जल भराव 311 मीटर तक होने की संभावना है। इस स्तर तक जल भराव के पूर्व प्रभावित परिवारों के पुनर्वास की कार्यवाही पूर्ण कर ली जावेगी। पुनर्वास कॉलोनियों के अधोसंरचना निर्माण संबंधी अब तक की कार्यवाही संतोष-जनक होने से किसी के विरूद्ध कार्यवाही करने की स्थिति नहीं है।
उर्वरक, बीज एवं कीटनाशक दवाइयों की जाँच
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
16. ( *क्र. 6924 ) श्री मुकेश पण्ड्या : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विकासखण्ड बड़नगर में वर्ष 2014-15 एवं 2015-16 में विभागीय अधिकारियों के द्वारा कितनी दुकानों से उर्वरक, बीज एवं कीटनाशक दवाइयों के नमूने जाँच कराने हेतु लिये गये? (ख) कितनी दुकानों के लायसेंस निरस्त हुए, कितने व्यापारियों को चेतावनी दी गई, कितने व्यापारियों एवं दुकानों के विरूद्ध कार्यवाही की गई? (ग) वर्ष 2014-15 एवं 2015-16 में विकासखण्ड बड़नगर में कितने व्यापारियों को नये लायसेंस जारी किये गये तथा किस अधिकारी द्वारा जारी किये गये?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) विकासखण्ड बड़नगर में वर्ष 2014-15 में 41 लायसेंसधारी से एवं 2015-16 में 48 लायसेंसधारी से विभागीय अधिकारियों के द्वारा उर्वरक बीज एवं कीटनाशक दवाइयों के नमूने जाँच कराने हेतु लिये गये। (ख) वर्ष 2014-15 में 10 लायसेंसधारी को कारण बताओ सूचना पत्र जारी कर अमानक नमूने के शेष स्कंध का विक्रय प्रतिबंधित किया गया। जिनमें से 03 लायसेंसधारी के लायसेंस निरस्त किये गये तथा 02 लायसेंसधारी के लायसेंस निलंबित किये गये। वर्ष 2015-16 में 06 लायसेंसधारी को कारण बताओ सूचना पत्र जारी कर अमानक नमूने के शेष स्कंध का विक्रय प्रतिबंधित किया गया। जिनमें से 01 लायसेंसधारी का लायसेंस निरस्त किया गया तथा 01 लायसेंसधारी का लायसेंस निलंबित किया गया। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
दो लाख रू. से कम लागत वाले कार्य
[जल संसाधन]
17. ( *क्र. 5790 ) श्री रामकिशन पटेल : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) उदयपुरा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत विकास खंड बाड़ी एवं उदयपुरा में वित्तीय वर्ष 01.04.2013 से प्रश्नतिथि तक 2 लाख रू. से कम राशि वाले क्या-क्या कार्य, किस-किस स्थान पर किये गये? (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित विकास खंड में उक्त समयानुसार मेन्टेनेन्स पर किस-किस स्थान पर, किस-किस प्रकार के कार्यों पर, कितनी राशि व्यय की गयी? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) में उल्लेखित कार्यों में से किस-किस को कितनी-कितनी राशि का भुगतान किस-किस रूप में किया गया? (घ) प्रश्नांश (क) एवं (ख) में उल्लेखित स्थानों एवं समयानुसार उक्त सभी कार्यों का गुणवत्ता एवं उपयोगिता प्रमाण पत्रों को किस-किस नाम/पदनाम द्वारा जारी किया गया?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) से (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'क' एवं 'ख' अनुसार है।
अनुदान योजनाओं का क्रियान्वन
[उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण]
18. ( *क्र. 6102 ) श्री मुरलीधर पाटीदार : क्या राज्यमंत्री, उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अनुदान पर नेट हाऊस, पैक हाऊस निर्माण योजनान्तर्गत आगर एवं शाजापुर जिले हेतु वित्तीय वर्ष 2014-15 से 2016-17 तक कितना-कितना लक्ष्य निर्धारित था? लक्ष्य के विरूद्ध कितने हितग्राहियों को नेट हाऊस, पैक हाऊस स्वीकृत किये गये? वित्तीय वर्षवार सूची उपलब्ध करावें। उक्त के अलावा शाजापुर एवं आगर जिले में उद्यानिकी विभाग की अन्य कौन-कौन सी अनुदान योजनायें संचालित की जा रही हैं? (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित हितग्राहियों में से कितने हितग्राहियों ने स्वयं निर्माण कार्य करवाया? कितने हितग्राहियों के निर्माण कार्य अनुबंध अंतर्गत कम्पनियों/निजी एजेन्सियों द्वारा किये गये? किन-किन कार्यों में आशय पत्र जारी नहीं किए गए हैं व किन कारणों से? (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार निर्मित नेट हाऊस, पैक हाऊस में से किन-किन के अनुदान भुगतान कर दिये गये हैं? किनके अनुदान भुगतान लंबित हैं व किस कारण से? क्या समीक्षा कर लंबित अनुदान भुगतान को शीघ्र भुगतान कराने एवं लंबित कार्यों को शीघ्र प्रारम्भ कराने हेतु ठोस कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो क्या व कब तक? (घ) वित्तीय वर्ष 2017-18 में आगर जिला अंतर्गत नेट हाऊस, पैक हाऊस निर्माण एवं अन्य अनुदान योजनाओं हेतु क्या लक्ष्य निर्धारित हैं? लक्ष्य पूर्ति हेतु क्या रणनीति बनाई गई है?
राज्यमंत्री, उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण ( श्री सूर्यप्रकाश मीना ) : (क) आगर एवं शाजापुर जिले में नेट हाउस/पैक हाउस की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। हितग्राहियों की वर्षवार सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। अन्य योजनाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। (ख) उत्तरांश (क) में उल्लेखित हितग्राहियों में से पैक हाउस के 21 हितग्राहियों ने स्वयं निर्माण कार्य किया है। शेडनेट हाउस के 68 हितग्राहियों ने अनुबंध अंतर्गत चयनित कंपनियों से निर्माण कार्य कराया है। प्राप्त सभी आवेदनों के आशय पत्र जारी कर दिये गये हैं। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) उत्तरांश (क) के पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार 17 शेडनेट हाउस के भुगतान बजट आवंटन न होने के कारण लंबित हैं। समीक्षा की गई है। बजट के पुनर्विनियोजन की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है बजट प्राप्त होने पर भुगतान किया जायेगा। कोई कार्य लंबित नहीं है अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) लक्ष्य पूर्ति की रणनीति यह है कि विभाग के पोर्टल पर ऑन लाईन प्रस्तुत आवेदनों में से जिले हेतु निर्धारित न्यूनतम लक्ष्य उपयोग होने के बाद राज्य स्तर पर पूल से जिले द्वारा लक्ष्य लेकर पात्र कृषकों को प्रथम आओ प्रथम पाओ के आधार पर चयन किया जाता है। आगर जिले में प्रश्नाधीन योजना में वित्तीय वर्ष 2017-18 के ऑन लाईन लक्ष्य 1 अप्रैल 2017 के बाद उपलब्ध होगें।
पॉली हाउस की स्वीकृति
[उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण]
19. ( *क्र. 4069 ) श्री राजेन्द्र फूलचंद वर्मा : क्या राज्यमंत्री, उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र में 01.01.2015 से 01.01.2017 तक कितने पॉली हाऊस स्वीकृत किये गये? माहवार जानकारी देवें। (ख) उपरोक्त समयावधि के स्वीकृत पॉली हाऊसों को कितना अनुदान स्वीकृत किया गया एवं आज दिनांक तक कितना अनुदान वितरित किया गया, प्रत्येक प्रकरण के संबंध में बतायें। (ग) स्वीकृत पॉली हाऊस कितने मीटर के थे एवं वितरित पॉली हाऊस कितने मीटर के हैं? क्या सभी प्रकरणों का भौतिक सत्यापन किया गया है? क्या स्वीकृत से कम निर्माण पर पूर्ण अनुदान राशि वितरित करने वाले अधिकारियों पर शासन कोई कार्यवाही करेगा?
राज्यमंत्री, उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण ( श्री सूर्यप्रकाश मीना ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ग) स्वीकृत/वितरित पॉली हाउस के आकार की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। 2 पूर्ण रूप से निर्मित पॉली हाउस का भौतिक सत्यापन किया गया, जो स्वीकृत अनुसार है। शेष 6 पॉली हाउस निर्माणाधीन होने से भौतिक सत्यापन नहीं होने एवं अनुदान वितरण नहीं होने से शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
टोल नाके पर मापदण्डों के अनुरूप आवश्यक सुविधाओं की पूर्ति की जाना
[लोक निर्माण]
20. ( *क्र. 5962 ) श्री सोहनलाल बाल्मीक : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी जिले के फुलारा में संचालित टोल नाके का संचालन शासन द्वारा तय मापदण्डों के अनुरूप नहीं किया जा रहा है? उपरोक्त टोल नाके पर जो कर्मचारी खड़े रहकर वसूली करते हैं, वे अक्सर नशे की हालत में रहते हैं, जिनके द्वारा गुण्डागर्दी करते हुए आमजनों व जनप्रतिनिधियों को जानबूझकर परेशान करते हुए विवाद की स्थिति निर्मित की जाती है? क्या यह उचित है? क्या टोल प्लाजा में जो कर्मचारी कार्यरत हैं, क्या उन सभी कर्मचारियों को पुलिस वेरीफिकेशन कराने के बाद नियुक्त किया गया है? (ख) क्या टोल नाके पर तय मापदण्डों के अनुसार आवश्यक सुविधायें प्रदान की जाना चाहिए। अगर हाँ तो फुलारा के उक्त टोल नाके पर ना तो शौचालय की सुविधा है और ना ही पेयजल की व्यवस्था है एवं एम्बुलेंस में कोई मेडिकल स्टॉफ भी मौजूद नहीं रहता है? उपभोक्ताओं को निर्धारित मापदण्डों के अनुरूप आवश्यक सुविधायें प्रदान नहीं की जा रही हैं, तो क्या इसकी जाँच कर उचित कार्यवाही की जायेगी? (ग) क्या जिस जगह पर टोल नाका स्थित होता है, उसके आसपास के लगभग 20 कि.मी. की दूरी पर निवासरत स्थानीय लोगों के वाहनों के मासिक पास बनाये जाने का प्रावधान है? अगर हाँ तो विगत एक वर्ष में उपरोक्त टोल नाके में अभी तक कितने स्थानीय लोगों को मासिक पास बनाये गये हैं?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : यह सड़क भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के पास है। उनसे प्राप्त उत्तर के अनुसार जानकारी निम्नानुसार है :- (क) सिवनी जिले के फुलारा में संचालित टोल नाके का संचालन शासन द्वारा तय मापदण्ड के अनुरूप ही किया जा रहा है। जी नहीं। जी हाँ। (ख) जी हाँ। फुलारा टोल प्लाजा में टोल एजेंसी के साथ हुए करार के अनुसार शौचालय एवं पेयजल की सुविधा प्रदान की जा रही है। घटना प्रबंधन (Incident Management) हेतु नियुक्त की गई कंपनी द्वारा एम्बुलेंस की सुविधा माह दिसंबर, 2016 से प्रारंभ की गई थी। प्रारंभिक समय में मेडिकल स्टॉफ के सक्रिय होने में कुछ कठिनाइयों का सामना किया गया था, जिन्हें दूर किया गया। वर्तमान में एम्बुलेंस में मेडिकल स्टॉफ उपलब्ध है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। वर्तमान में कार्यरत टोल कंपनी का करार दिनांक 10.10.2016 को भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के साथ हुआ। करार उपरांत माह दिसंबर 2016 से 02 मार्च, 2017 तक कुल 131 मासिक पास बनाये गये।
नदी किनारे बसे ग्रामों में पुल का निर्माण
[लोक निर्माण]
21. ( *क्र. 3919 ) श्री रामप्यारे कुलस्ते : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या निवास विधानसभा क्षेत्रांतर्गत बहुत से ग्राम नदियों के किनारे बसे हुये हैं, यहां के ग्रामवासियों को नदियों में पुल नहीं होने के कारण पैदल नाव आदि से पार कर आवागमन करना पड़ता है, जिससे इन्हें बहुत अधिक परेशानी हो रही है? लगभग 20 से 25 ग्रामों के ग्रामवासियों को बारिश के दिनों में नदी में अत्यधिक बाढ़ आ जाने के कारण अपने ही ग्रामों में कैद रहने को मजबूर होना पड़ता है? (ख) क्या ग्राम चिमका, टोला बसगढ़ी, बढ़झर, झिंगराघाट, बुढ़नेर, कोबरीखुर्द, बालई, घुघरी वनग्राम जो कि नदी के किनारे हैं, इन ग्रामों में पुल निर्माण की अत्यंत आवश्यकता है। क्या इन ग्रामों में पुल निर्माण की स्वीकृति प्रदान करेंगे? (ग) यदि हाँ, तो कब तक और इन ग्रामों में पुल का निर्माण कब तक करा लिया जावेगा?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ, शेष प्रश्नांश की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के स्तम्भ 8 के अनुसार है। (ख) जी हाँ। शेष जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के स्तम्भ 8 के अनुसार है।
कृषि साख सहकारी संस्थाओं के कर्मचारियों को वेतन भुगतान
[सहकारिता]
22. ( *क्र. 5326 ) इन्जी. प्रदीप लारिया : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या कार्यालय आयुक्त सहकारिता एवं पंजीकृत सहकारी संस्थायें मध्यप्रदेश भोपाल द्वारा आदेश क्रमांक 1368, दिनांक 19.05.2016 को कृषि सहकारी संस्थाओं के कर्मचारियों के संबंध में संशोधन पत्र जारी किया गया था? (ख) क्या सागर जिले में जिला सहकारी बैंक मर्यादित एवं पंजीयक कार्यालय एवं प्राथमिक कृषि सहकारी समितियों द्वारा उक्त आदेश के तहत कर्मचारियों को वेतन वितरण किया जा रहा है? (ग) यदि सागर जिले में प्राथमिक सहकारी समितियों द्वारा पदस्थ कर्मचारियों जैसे सहायक प्रबंधक विक्रेता, लिपिक, चौकीदारों को निर्धारित वेतन प्रदाय नहीं किया जा रहा है? तो इसके लिये कौन उत्तरदायी है एवं कब तक वितरण किया जावेगा?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जी हाँ। (ख) सागर जिले में जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक तथा उपायुक्त सहकारिता कार्यालय द्वारा प्राथमिक कृषि साख सहकारी संस्थाओं के कर्मचारियों को वेतन भुगतान नहीं किया जाता है। प्राथमिक कृषि साख सहकारी संस्थाओं द्वारा प्रश्नांश (क) में उल्लेखित आदेशानुसार कर्मचारियों को वेतन एवं भत्ते संस्था के संचालक मण्डल द्वारा संस्था की देय भुगतान क्षमता एवं अन्य निर्धारित मापदण्ड अनुसार संस्था की पात्रता के अंतर्गत दिया जायेगा, परंतु कर्मचारियों को निर्धारित कलेक्टर दर से प्रतिमाह पारिश्रमिक दिया जा सकेगा, प्रावधानित है। सागर जिले में प्रश्नांश (क) के आदेश के परंतुक अनुसार कर्मचारियों को निर्धारित कलेक्टर दर से प्रतिमाह पारिश्रमिक के स्थान पर प्रश्नांश (क) के आदेशानुसार संस्था की देय भुगतान क्षमता एवं अन्य निर्धारित मापदण्डों के अनुसार संस्था की पात्रता अंतर्गत वेतन दिया जा रहा है। (ग) सागर जिले में प्राथमिक कृषि साख सहकारी संस्थाओं द्वारा अपने कर्मचारियों को प्रश्नांश (क) में उल्लेखित आदेश के अंतर्गत संस्था की देय भुगतान क्षमता एवं अन्य निर्धारित मापदंडों के अनुसार वेतन भुगतान किया जा रहा है। अतः शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होते।
ट्यूबवेल उत्खनन कार्य हेतु स्वीकृत राशि
[लोक निर्माण]
23. ( *क्र. 6382 ) पं. रमाकान्त तिवारी : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा क्षेत्र विकास निधि 2016-17 से लोक निर्माण विभाग उपसंभाग त्योंथर जिले को विश्राम गृह त्योंथर एवं चाकघाट में ट्यूबवेल उत्खनन एवं सबमर्सिबल पंप हेतु क्रमश: 1-1 लाख रूपये दिये गये हैं? (ख) यदि हाँ, तो प्रश्नांश (क) में वर्णित कार्यों हेतु जिला योजना समिति रीवा से विभाग को कब कितनी राशि प्राप्त हुई? (ग) क्या उपरोक्त कार्य पूर्ण करा लिये गये? यदि नहीं, तो क्यों? कब तक ट्यूबवेल उत्खनन का कार्य पूर्ण होगा?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) आयुक्त, आर्थिक एवं सांख्यिकी संचालनालय के पत्र दिनांक 17.01.2017 से प्रमुख अभियंता लोक निर्माण विभाग को रू. 2.00 लाख की राशि प्राप्त हुई। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी नहीं। एजेन्सी नियत नहीं। एजेन्सी नियत किये जाने की कार्यवाही प्रचलन में है। कार्य मई 2017 तक कराने का लक्ष्य है।
विधान सभा क्षेत्र पंधाना अंतर्गत संचालित मृदा परीक्षण प्रयोगशालाएं
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
24. ( *क्र. 3225 ) श्रीमती योगिता नवलसिंग बोरकर : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के विधान सभा क्षेत्र पंधाना अंतर्गत कितनी मृदा परीक्षण प्रयोगशालाएं हैं और विगत दो वर्ष में कितने किसानों के खेतों की मिट्टी का परीक्षण किया गया है? (ख) इन मृदा परीक्षण प्रयोगशालाओं से किसानों को क्या लाभ मिला है?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) खण्डवा जिले में विभागीय एक मिट्टी परीक्षण प्रयोगशाला स्थापित है, जिसमें पंधाना विधानसभा क्षेत्र के साथ-साथ जिले के अन्य समस्त कृषकों के खेतों की मिट्टी के नमूनों का परीक्षण किया जाता है। पंधाना विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत विगत 02 वर्षों में वर्ष 2014-15 में 6081 एवं 2015-16 में 4043 कुल 10124 किसानों के खेत की मिट्टी के नमूनों का परीक्षण किया जाकर मृदा स्वास्थ्य कार्ड उपलब्ध कराये गये हैं। (ख) मृदा परीक्षण प्रयोगशाला में मृदा नमूनों का परीक्षण कर मृदा में उपलब्ध पोषक तत्वों का स्तर तथा मृदा की अम्लीय/क्षारीय प्रकृति ज्ञात की जाती है। मृदा नमूनों के विश्लेषण उपरांत विश्लेषण परिणाम के आधार पर संबंधित कृषक को फसल अनुसार पोषक तत्वों/उर्वरकों की मात्रा की अनुशंसा के साथ किसानों को मृदा स्वास्थ्य कार्ड उपलब्ध कराये गये हैं। स्वाइल हेल्थ कार्ड में फसल अनुसार अनुशंसित पोषक तत्वों/उर्वरकों का कृषकों द्वारा उपयोग किये जाने से फसलों की उत्पादकता में वृद्धि हुई है तथा मृदा की उर्वरता बनाये रखने/सुधार में मदद मिलती है।
विभाग द्वारा संचालित योजनाएं
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
25. ( *क्र. 4774 ) श्री अजय सिंह : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला सीधी अंतर्गत विगत 01 अप्रैल 2014 से प्रश्न तिथि तक कृषि विभाग द्वारा कौन-कौन सी योजनाएं संचालित रही हैं? योजनावार, विकासखण्डवार जानकारी दें। (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित योजना के अन्तर्गत जिले के किस-किस विकासखण्ड के कितने किसानों को क्या-क्या लाभ दिया गया है? कृपया विकासखण्डवार योजनावार, किसान की संख्या सहित जानकारी दें। (ग) जिला सीधी के अन्तर्गत 01 अप्रैल 2014 से प्रश्न तिथि तक किसानों के लिये कितने बीज का भण्डारण किया गया? योजनावार, फसलवार मात्रा की जानकारी विकासखण्डवार दें। (घ) प्रश्नांश (क) में वर्णित योजनाओं में कितने किसानों को कितना-कितना बीज प्रदाय किया गया है? विकासखण्डवार, जिन्सवार, किसानों की संख्यात्मक जानकारी दें।
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-4 अनुसार है।
भाग-2
नियम 46 (2) के
अंतर्गत
अतारांकित
प्रश्नोत्तर
के रुप में
परिवर्तित
तारांकित
प्रश्नोत्तर
दस लाख से
अधिक के ऋणों
की संख्या
[सहकारिता]
1. ( क्र. 39 ) श्री हितेन्द्र सिंह ध्यान सिंह सोलंकी : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) खरगोन जिले में सहकारिता विभाग में पूर्व महाप्रबंधक के कार्यकाल में रूपये दस लाख से अधिक के ऋण कितने व्यक्तियों को वितरण किया गया है? नाम पता और किस उद्देश्य से दिया गया है वर्षवार सम्पूर्ण जानकारी दी जावे। (ख) प्रश्नांश (क) के अनुसार दिए गए ऋण में से कितना ऋण वर्षवार वसूल हो चुका है और कितना वसूल होना शेष है। शेष राशि वसूल न होने के क्या कारण है, राशि वसूल न होने पर विभाग ने क्या कार्यवाही की है। (ग) क्या प्रश्न (क) के अनुसार ऋण में वितरण महाप्रंबधक के विरुद्ध कोई गंभीर जाँच चल रही है अथवा जाँच पूर्ण हो चुकी है? यदि पूर्ण हो चुकी तो क्या दंड दिया गया यदि नहीं, तो जाँच कब पूर्ण हो जावेगी उसकी समय-सीमा बताई जावे। क्या पूर्व महा प्रबंधक के सेवानिवृत्त के पूर्व उनके स्वत्वों का भुगतान (ग्रेच्युटी,पी.पी.एफ आदि) हो चुका है यदि हाँ, तो किस अधिकारी के द्वारा किया गया है,क्या जाँच पूर्ण न होने के पूर्व ये भुगतान कर सकते हैं? (घ) यदि हाँ, तो नियम की प्रति दी जावे यदि नहीं, तो वह अधिकारी जिन्होंने भुगतान किया है उसके विरुद्ध क्या कार्यवाही कब तक की जावेगी?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मर्यादित, खरगोन में पदस्थ पूर्व महाप्रबंधक के कार्यकाल में रूपये 10 लाख से अधिक के ऋण 73 व्यक्तियों को स्वीकृत एवं वितरित किये गये। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। शेष राशि में से कतिपय ऋणी सदस्यों की ऋण अवधि शेष होकर ऋण नियमित है, 17 ऋण प्रकरणों में ऋण कालातीत हो गये हैं। कालातीत ऋणी सदस्यों से शेष वसूली करने हेतु बैंक द्वारा सूचना पत्र जारी किये गये है तथा कतिपय प्रकरणों में वसूली हेतु सहकारी अधिनियम की धारा 64 के अंतर्गत न्यायालय में प्रकरण लगाये गये है। (ग) उत्तरांश 'क' में उल्लेखित ऋण प्रकरणों के संबंध में कोई जाँच नहीं चल रही है। प्रश्न उपस्थित नहीं होता। जी हाँ, भुगतान स्वयं पूर्व महाप्रबंधक द्वारा प्राप्त कर लिया गया था, कर्मचारी सेवानियम के प्रावधानों के अंतर्गत जाँच प्रकरण लंबित होने पर स्वत्वों का भुगतान नहीं किया जाता है। (घ) कर्मचारी सेवानियम प्रावधानों के अंतर्गत जाँच प्रकरण लंबित होने पर स्वत्वों का भुगतान नहीं किया जाता है। भुगतान पूर्व महाप्रबंधक द्वारा स्वयं प्राप्त कर लिया गया था। भुगतान पूर्व महाप्रबंधक द्वारा स्वयं प्राप्त कर लेने के संबंध में जाँच आदेशित की गई है, शेष जाँच निष्कर्षाधीन।
सेवानिवृत्त कर्मचारियों को उनके स्वत्वों का समय-सीमा में भुगतान
[सहकारिता]
2. ( क्र. 180 ) श्री हितेन्द्र सिंह ध्यान सिंह सोलंकी : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राज्य सहकारी कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक शाखा खरगोन अंतर्गत विगत ३ वर्षों में कितने कर्मचारी सेवानिवृत्त हुए हैं? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार इन सेवानिवृत्त कर्मचारियों की सेवानिवृत्ति उपरांत उनके स्वत्वों के भुगतान उनके अधिवार्षिकी पूर्ण करने के दिनांक से कितने दिनों के भीतर कौन-कौन सी राशि का भुगतान किया गया है? (ग) क्या प्रश्नकर्ता द्वारा प्रश्नांश (क) में उल्लेखित विभाग के किसी कर्मचारी के लंबित स्वत्वों के भुगतान के बारे में अनुरोध पत्र लिखा गया था? यदि हाँ, तो कितने पत्र लिखे गए हैं एवं विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई, कर्मचारियों के सेवानिवृत्त होने के बाद उनके स्वत्वों के भुगतान के क्या नियम है? यदि विलम्ब से भुगतान होता है तो क्या कर्मचारी को कोई क्षतिपूर्ति की जाती है? (घ) यदि हाँ, सेवानिवृत्त कर्मचारी को समय पर भुगतान न होने पर संबंधित दोषी अधिकारी कर्मचारी के विरूद्ध द्वारा शासन क्या कार्यवाही की जावेगी और कब की जावेगी, समय-सीमा बताई जावे तथा कब तक उनके स्वत्वों का भुगतान कर दिया जाएगा, विलम्ब का कारण सहित जानकारी देवें?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) राज्य सहकारी कृषि और ग्रामीण विकास बैंक शाखा खरगोन में नहीं अपितु जिला सहकारी कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक खरगोन में विगत 3 वर्षों में 23 कर्मचारी सेवानिवृत्त हुए हैं। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी हाँ। दो पत्र। जिला सहकारी कृषि और ग्रामीण विकास बैंक खरगोन को आवश्यक कार्यवाही के निर्देश दिये गये। सेवानिवृत्ति पर स्वत्वों का भुगतान जिला सहकारी कृषि और ग्रामीण विकास बैंक कर्मचारी सेवानियम के अनुसार किया जाता है। जी नहीं। (घ) जिला सहकारी कृषि और ग्रामीण विकास बैंक खरगोन द्वारा दिये गये ऋणों के विरूद्ध वसूली नहीं कर पाने के कारण सेवानिवृत्त कर्मचारियों को समय पर भुगतान नहीं किया जा सका। वर्तमान में उपरोक्त बैंक परिसमापनाधीन है एवं परिसमापक द्वारा वसूली के पश्चात वरीयता के आधार पर देनदारियों का यथासंभव भुगतान किया जायेगा।
नवीन पुल निर्माण की स्वीकृति
[लोक निर्माण]
3. ( क्र. 1038 ) श्री दुर्गालाल विजय : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के परि.अता. प्रश्न संख्या 23 (क्रमांक 605) दिनांक 21.07.2016 के प्रश्नांश (क) के उत्तर में बताया है कि श्योपुर विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत ग्राम नयागांव-शाहपुरा के मध्य गुजर रही सीप नदी के दाहिने व बायीं ओर कराहल व श्योपुर तहसील के विद्यमान दर्जनों ग्रामों के नागरिकों को दोनों ओर के ग्रामों में जाने आने हेतु 22 से 38 कि.मी. की दूरी साधनों के अभाव में तय करना पड़ती है इस कारण उन्हें कठिनाई होती है? तो क्या उक्त कठिनाई का हल तभी संभव है जब नयागांव-शाहपुरा के मध्य सीप नदी पर नवीन पुल का निर्माण करा दिया जावे पुल निर्माण उपरांत न केवल दूरी कम हो जावेगी बल्कि नागरिकों को सीधे आवागमन की सुविधा भी उपलब्ध हो जावेगी इस हेतु नागरिक मांग भी कर रहे है? (ख) यदि हाँ, तो क्या शासन क्षेत्रीय नागरिकों के हित के मद्देनजर उक्त नवीन पुल निर्माण कार्य की डी.पी.आर. तैयार करवाएगा तथा इसे बजट में शामिल कर डी.पी.आर. को शीघ्र स्वीकृति प्रदान करेगा यदि नहीं, तो क्यों?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। जी हाँ। (ख) प्रश्नांकित मार्ग विभाग के कार्यक्षेत्र अंतर्गत न होने से पुल निर्माण की कार्यवाही की जाना संभव नहीं है।
मार्ग निर्माण की स्वीकृति
[लोक निर्माण]
4. ( क्र. 1039 ) श्री दुर्गालाल विजय : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या श्योपुर विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत ग्राम ढोटी से ननावद व्हाया किलोरच मार्ग वर्तमान में क्षतिग्रस्त होकर जर्जर स्थिति में हैं इस कारण ग्रामीणों को आवागमन में कई प्रकार की समस्याओं का सामना करने के कारण मार्ग का उन्नतिकरण कराया जाना नितांत आवश्यक हैं क्योंकि ये मार्ग क्षेत्र का व्यस्ततम एवं महत्वपूर्ण मार्ग भी है? (ख) क्या उक्त स्थिति को दृष्टिगत रखते हुए ई.ई. लो.नि.वि. श्योपुर द्वारा उक्त मार्ग के उन्नतीकरण हेतु 4 करोड़ का प्रस्ताव तैयार कर प्रमुख अभियंता लो.नि.वि. भोपाल को भेजा भी जा चुका हैं। (ग) क्षेत्रीय नागरिकों को बेहतर आवागमन की सुविधा उपलब्ध कराने हेतु क्या शासन उक्त मार्ग के उन्नतीकरण कार्य को आगामी बजट में शामिल करके उक्त प्रस्ताव को यथाशीघ्र स्वीकृति प्रदान करेगा, यदि नहीं, तो क्यों?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ, विभागीय श्रमिकों एवं उपलब्ध संसाधनों से मार्ग को यातायात हेतु सुगम बनाया हुआ है। (ख) जी हाँ। (ग) वर्तमान में सीमित वित्तीय संसाधन होने के कारण स्वीकृति की समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
निर्मित स्टॉप डेम का घटिया निर्माण
[जल संसाधन]
5. ( क्र. 1448 ) श्री प्रताप सिंह : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बुंदेलखण्ड पैकेज से निर्मित कोटखेड़ा ग्राम के समीप अधिकारियों की मिलीभगत से घटिया निर्माण होने से 85 लाख रूपये से अधिक की लागत से निर्मित स्टॉप डेम महज अनुपयोगी बनकर रह गया है, कृषकों को सिंचाई हेतु पानी नहीं मिल रहा है? (ख) क्या घटिया निर्माण होने के कारण पहले वर्ष में ही दीवारों से पानी रिसने लगा था? यदि हाँ, तो उसी समय उल्लेखित तकनीकी त्रुटि में सुधार कार्य संबंधित ठेकेदार से क्यों नहीं करवाया गया, इसके लिए कौन जिम्मेदार है? ठेकेदार को निर्माण कार्य का सम्पूर्ण भुगतान कब किया गया था? कार्य का मूल्यांकन एवं सी.सी. जारी किस दिनांक को की गई थी? मूल्यांकनकर्ता एवं सी.सी. जारी किये जाने वाले अधिकारी का नाम एवं पता बतलावें? (ग) क्या प्रदेश शासन प्रश्नांश (क) उल्लेखित स्टॉप डेम के घटिया निर्माण की जाँच उच्चस्तरीय समिति से करवायेगी?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) जी नहीं। (ख) जी नहीं। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होते हैं। जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-'अ' अनुसार है। कार्य की सी.सी. दिनांक 30.04.2012 को जारी किया जाना प्रतिवेदित है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-'ब' अनुसार है। (ग) प्रश्नांश ''क'' के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मार्ग निर्माण की घटिया सामग्री का प्रदाय
[लोक निर्माण]
6. ( क्र. 1449 ) श्री प्रताप सिंह : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या रहली-झलौन-तेन्दूखेड़ा-व्हाया-पाटन-जबलपुर मार्ग का निर्माण एम.पी.आर.डी.सी. द्वारा कराया जा रहा है, इसकी प्रशासनिक स्वीकृति कितनी राशि की जारी की गई है? मार्ग के डी.पी.आर. की एक प्रति भी उपलब्ध करावें। (ख) मार्ग का निर्माण किस ठेकेदार/कम्पनी द्वारा किया जा रहा है तथा किस अधिकारी की देख-रेख में किया जा रहा है? उसका नाम, पता एवं पद सहित बतलावें? प्रश्न दिनांक तक कहाँ से कहाँ तक मार्ग का निर्माण किस स्तर पर किया जा चुका है? (ग) क्या मार्ग निर्माण में घटिया सामग्री का उपयोग पाये जाने पर घटिया लाल गिट्टी को प्रतिबंधित किये जाने एवं मौके के स्थल निरीक्षण उपरांत वस्तुस्थिति से अवगत कराने हेतु प्रश्नकर्ता के पत्र क्रमांक 920 दिनांक 09/01/2017 से संभागीय प्रबंधक सागर से अनुरोध किया था? यदि हाँ, तो अभी तक क्यों नहीं अवगत कराया गया? (घ) यदि मार्ग निर्माण में घटिया सामग्री का उपयोग किया जा रहा है तो उसे प्रतिबंधित किये जाने एवं जनता के पैसों के दुरूपयोग को रोकने की किसकी जिम्मेदारी बनती है? क्या शासन स्वयं संज्ञान में लेकर उल्लेखित मार्ग की जाँच हेतु वरिष्ठ शासन स्तर के अधिकारियों को भेजकर वस्तुस्थिति ज्ञात करेगा तथा दोषी पाये जाने वाले अधिकारियों/ठेकेदार के विरूद्ध उचित कार्यवाही करेगा? यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। रू. 219.62 करोड़। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'1' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'अ' अनुसार है। (ग) जी हाँ। संभागीय प्रबंधक के पत्र क्र. 2104 दिनांक 03.02.2017 द्वारा अवगत कराया गया है। (घ) मार्ग निर्माण में अनुबंध एवं निर्धारित मापदण्डों के अनुरूप सामग्री का ही उपयोग किया जा रहा है। अतः शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
भू-जल स्तर गिरावट का आंकलन
[जल संसाधन]
7. ( क्र. 1498 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या पनागर विधानसभा क्षेत्र के बरेला क्षेत्र अंतर्गत डूंडी, बीजापुरी, मलारा, तिलहरी, सिहोरा, सरोरा, आदि लगभग सभी ग्रामों में भू-जल स्तर गिरावट खतरनाक स्तर पर पहुँच गया है? (ख) क्या विभाग द्वारा इन ग्रामों के भू-जल स्तर गिरावट का आंकलन किया गया हैं? (ग) यदि हाँ, तो ग्रामवार जानकारी देवें? (घ) क्या ऐसे संकटपूर्ण स्थिति वाले ग्रामों के लिये कोई योजना है?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) पनागर विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत जल संसाधन विभाग द्वारा चयनित स्थाई अवलोकन कूपों के आधार पर वर्ष 2014-15 में किये गये भू-जल पुर्नआकंलन के अनुसार उक्त क्षेत्र सुरक्षित श्रेणी में वर्गीकृत है। (ख) से (घ) प्रश्नांश में उल्लेखित ग्रामों का अलग से भू-जल स्तर का आंकलन नहीं किया जाना प्रतिवेदित है। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होते हैं।
पनागर विधानसभा क्षेत्र के तालाबों का रख-रखाव
[जल संसाधन]
8. ( क्र. 1499 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या पनागर विधानसभा क्षेत्र अंर्तगत तालाबों के गहरीकरण व क्षतिग्रस्त तालाबों के मरम्मत की योजना हैं? (ख) यदि हाँ, तो तालाबवार विवरण देवें? (ग) यदि नहीं, तो क्या इन तालाबों के नहरों का पानी अंतिम छोर तक पहुँचेगा? (घ) क्या रख-रखाव न होने से सिंचाई क्षमता में कमी नहीं होगी?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) से (घ) जल संसाधन विभाग द्वारा तालाबों का गहरीकरण का कार्य नहीं किया जाता है। प्रश्नाधीन विधान सभा क्षेत्र में कोई सिंचाई जलाशय क्षतिग्रस्त नहीं होना प्रतिवेदित होने से शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होते हैं।
जिला सहकारी बैंक गुना द्वारा ऋण वसूली
[सहकारिता]
9. ( क्र. 1532 ) श्रीमती ममता मीना : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. शासन द्वारा वर्ष 2015-16 में जिला सहकारी बैंकों द्वारा प्रदाय किये गये ऋण की वसूली स्थगित किये जाने के निर्देश दिये गये थे अथवा अल्पावधि कृषि ऋणों को मध्यावर्ती ऋण में परिवर्तन किये जाने के निर्देश दिये गये थे? (ख) यदि हाँ, तो जिला सहकारी बैंक गुना की विभिन्न शाखाओं द्वारा किस आधार पर कृषकों से ऋण की राशि की ब्याज सहित वसूली गेहूँ की खरीदी के भुगतान से काटी गई? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) में वर्णित ऋण की वसूली करने वाले अधिकारियों के विरूद्ध क्या कार्यवाही कब तक की जावेगी?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) राज्य शासन द्वारा भारतीय रिजर्व बैंक के प्रावधान अनुसार प्राकृतिक आपदा से फसल प्रभावित होने के कारण खरीफ 2015 में वितरित अल्पकालीन फसल ऋण को फसल क्षति के आधार पर मध्यकालीन ऋण में परिवर्तन किये जाने के निर्देश दिये गये थे। (ख) कृषक सदस्यों की सहमति के आधार पर। (ग) उत्तरांश ''ख'' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नवीन सड़क निर्माण की स्वीकृति
[लोक निर्माण]
10. ( क्र. 1622 ) कुँवर हजारीलाल दांगी : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजगढ़ जिले की विधानसभा क्षेत्र खिलचीपुर अंतर्गत एम.पी.आर.डी.सी. द्वारा खिलचीपुर से सुसनेर मार्ग का निर्माण कितनी लागत से कब कराया गया था? (ख) क्या प्रश्नांश (क) वर्णित मार्ग वर्तमान में अत्यंत जीर्ण-शीर्ण होकर निरंतर आवागमन अवरूद्ध एवं दुर्घटनाओं का पर्याय बना हुआ है? यदि हाँ, तो क्या विभाग द्वारा उक्त मार्ग का मरम्मत कार्य भी कराया गया था? यदि हाँ, तो मरम्मत कार्य की लागत एवं एजेंसी का नाम सहित जानकारी देवें एवं क्या संबंधित एजेन्सी द्वारा अमानक स्तर का कार्य कराये जाने से उक्त मार्ग की अवस्था जस की तस है? यदि हाँ, तो प्रश्न दिनांक तक विभाग द्वारा उक्त मार्ग के जीर्णोद्धार एवं संबंधित ठेकेदार के विरूद्ध कोई कार्यवाही की गई? यदि हाँ, तो क्या? (ग) क्या शासन उक्त मार्ग पर नवीन सड़क निर्माण की स्वीकृति प्रदान करेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) राजगढ़ जिले की विधानसभा खिलचीपुर अंतर्गत एम.पी.आर.डी.सी. द्वारा खिलचीपुर-सुसनेर मार्ग का निर्माण लागत रूपये 26.34 करोड़ से दिनांक 30.06.2007 को पूर्ण कराया गया। (ख) जी नहीं। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। जी नहीं, प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) विषयांकित मार्ग दिनांक 14.06.2016 से राष्ट्रीय राजमार्ग क्रं.-752 बी घोषित होने से भारत सरकार द्वारा भविष्य में कार्यवाही की जावेगी। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं।
जिला सहकारी बैंक की प्राप्त शिकायत पर कार्यवाही
[सहकारिता]
11. ( क्र. 1727 ) श्री महेन्द्र सिंह कालूखेड़ा : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मंदसौर जिला सहकारी बैंक व विभिन्न शाखाओं की कितनी शिकायतें पिछले 05 वर्षों से लंबित हैं तथा किस-किस अधिकारी पर क्या-क्या आरोप है तथा किस-किस व्यक्ति ने शिकायतें की है? उनका विवरण देते हुये बताएं कि उन पर क्या कार्यवाही की गई? (ख) होशंगाबाद भिण्ड रीवा व अन्य किस-किस जिला बैंक में केन्द्र सरकार द्वारा दी गई ऋणबंदी में कितने पात्र सदस्यों की ऋण माफी नहीं हुई तथा कितने अपात्र लोगों की ऋण माफी हो गई तथा इस हेतु किस-किस की जिम्मेदारी तय कर क्या कार्यवाही हुई?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) बैंक से संबंधित शिकायतों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) प्रदेश की 38 जिला सहकारी केन्द्रीय बैंकों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है।
फसल बीमा
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
12. ( क्र. 1756 ) श्री लखन पटेल : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बैंकों द्वारा किसान क्रेडिट कार्ड धारक किसानों के खातों से उनकी बंधक भूमि पर बीमा की राशि स्वत: आहरित कर ली जाती है? (ख) यदि हाँ, तो बैंकों द्वारा प्रीमियम की राशि आहरित करने के पूर्व क्या किसानों से उनके द्वारा बोई गई फसल की जानकारी ली जाती है? यदि नहीं, तो फसल का बीमा किस फसल का बोया जाना मान कर किया जाता है तथा यदि बैंक द्वारा बीमित की गई फसल से भिन्न फसल मौके पर किसान ने बोई है तो ऐसी स्थिति में प्राकृतिक आपदा से नुकसान होने पर क्या किसान को कंपनी से बीमा का लाभ मिलेगा? यदि नहीं, तो इसके लिए कौन जिम्मेदार होगा? (ग) यदि किसान द्वारा अधिसूचित फसल से भिन्न कोई फसल बोई गई है या कोई फसल नहीं बोई गई तो बैंक द्वारा कृषक के बैंक खाते से प्रीमियम की राशि किस आधार पर आहरित की जाती है? ऐसी स्थिति में यदि किसान बीमा क्लेम करता है जो जिले में अधिसूचित नहीं है एवं फसल की क्षति होती है तो क्या उसे बीमा का लाभ दिया जावेगा? यदि नहीं, तो क्या बीमा प्रीमियम का स्वत: आहरण करना उचित है? किसान द्वारा प्रीमियम जमा करने के बाद भी बीमा का लाभ न मिलने के लिए जिम्मेदार कौन माना जायेगा एवं किसान को उसकी क्षतिपूर्ति किससे मिलेगी? (घ) असफल बुआई का बीमा अपने आप में विरोधाभाषी है इसमें 72 घंटों के अंदर बीमा कंपनी को सूचना देनी होती है जबकी अऋणी कृषक का बीमा बिना बोनी प्रमाण पत्र के नहीं होता है, इस स्थिति में अऋणी कृषक को बीमा का लाभ कैसे दिया जावेगा, जबकि उसका बीमा किया ही नहीं गया है?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के अनुसार जो किसान बैंक से ऋण लेता है उनके लिये योजना अनिवार्य है एवं जो किसान बैंक से ऋण नहीं लेता है उनके लिये योजना वैकल्पिक है। यदि कोई किसान शासन द्वारा बीमांकन हेतु चयनित क्षेत्र में चयनित फसल में ऋण लेता है तो बैंकों का दायित्व होता है कि वह उन किसानों की फसलों का अनिवार्य आधार पर बीमा करें। (ख) किसान जब बैंक से ऋण स्वीकृत कराता है तो वह बैंक में बोई जाने वाली फसल का उल्लेख करता है और वह फसल उस जिले/तहसील/पटवारी हल्के में बीमांकन हेतु शासन द्वारा अधिसूचित की गई है तो बैंक उक्त किसान की फसल का बीमा प्रीमियम काटकर अनिवार्य आधार पर बीमा कंपनी को भेजता है। यदि किसान फसल बदलता है तो यह किसान का दायित्व है कि वो बैंक को सूचित करे ताकि परिवर्तित फसल के आधार पर उसका बीमा किया जा सके, ताकि क्षति होने पर तदानुसार क्षतिपूर्ति की जा सके। जो फसल अधिसूचित नहीं है, अथवा जिसका प्रीमियम जमा नहीं हुआ है उनका बीमा लाभ मिलने का प्रश्न ही नहीं उठता। (ग) उत्तरांश 'क' एवं 'ख' अनुसार। (घ) असफल बुआई की स्थिति में अधिसूचित क्षेत्र की अधिसूचित फसल के कुल रकबे के 75 प्रतिशत से अधिक क्षतिग्रस्त होने पर यह जोखिम लागू होगा। इस प्रावधान के अंतर्गत बीमित राशि का अधिकतम 25 प्रतिशत भुगतान किया जावेगा तथा प्रभावित बीमित इकाई में दावा राशि भुगतान होने पर बीमा स्वत: निरस्त हो जावेगा तथा इसके उपरांत संबंधित बीमित इकाई में संबंधित फसल के लिये अन्य कोई दावा मान्य नहीं होगा। योजना के प्रावधान अनुसार जिला प्रशासन के संयुक्त दल की फसल स्थिति रिपोर्ट एवं अन्य सूचनाओं के आधार पर जिला कलेक्टर द्वारा क्षति की अधिसूचना जारी की जायेगी। तदानुसार प्रभावित कृषकों को दावा राशि का भुगतान किया जायेगा। अत: ऋणी एवं अऋणी कृषकों द्वारा प्रीमियम जमा करने की दिनांक से यह प्रावधान लागू होता है। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
13. ( क्र. 1954 ) श्री जितेन्द्र गेहलोत : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना का ब्यौरा क्या है? उक्त योजना कब से लागू की गई? ब्यौरा दें। (ख) प्रश्नांश (क) योजनांतर्गत रतलाम- उज्जैन एवं मंदसौर जिले की कितनी एवं कौन-कौन सी योजनाएं प्रस्तावित एवं स्वीकृति हेतु लंबित तथा कितनी व कौन-कौन सी योजनाएं स्वीकृत हो चुकी है? पूर्ण ब्यौरा जिलेवार, तहसीलवार दें। (ग) प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजनांतर्गत वर्ष २०१७ का जिला तथा तहसीलवार प्रश्नांश (क) में उल्लेखित जिलों का लक्ष्य क्या है?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना का उद्देश्य ग्राम स्तर पर सिंचाई क्षेत्र में निवेश को बढ़ाकर हर खेत को पानी उपलब्ध कराना तथा उपलब्ध जल का प्रबंधन कर ''पर ड्राप मोर क्राप'' के लक्ष्य को प्राप्त करना है। उक्त योजना वर्ष 2015-16 से संचालित है। (ख) प्रश्नांश (क) योजनांतर्गत रतलाम, उज्जैन एवं मंदसौर जिलों की प्रधानमंत्री सिंचाई योजना के अंतर्गत जलाशय निर्माण, नहरों का पक्कीकरण एवं वाटरकोश निर्माण, फार्म पॉण्ड, चेक डेम, अरदन चेक डेम, स्टॉप डैम, नाला बंधान, परकोलेशन टैंक इत्यादि जल संरक्षण के कार्य जिले की डी.आई.पी. में प्रस्तावित है। रतलाम एवं मंदसौर जिले की जिला सिंचाई योजना (डी.आई.पी.) का दिनांक 22.12.2016 को राज्य स्तरीय मंजूरी समिति की बैठक में अनुमोदन प्राप्त हो चुका है। उज्जैन जिले की डी.आई.पी. का जिले के माननीय प्रभारी मंत्री से अनुमोदन प्राप्त हो चुका है। जिला योजना समिति उज्जैन से अनुमोदन उपरांत राज्य स्तरीय मंजूरी समिति की आगामी बैठक में अनुमोदन हेतु रखा जाना प्रस्तावित है। जिलावार, विकासखंडवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ग) प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजनांतर्गत वर्ष 2017 का प्रश्नांश (क) में उल्लेखित जिलों में लक्ष्य की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र '2' अनुसार है।
नर्मदा नदी पर ब्रिज का निर्माण
[लोक निर्माण]
14. ( क्र. 2125 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) हरदा जिले के ग्राम छीपानेर से सिहोर जिले के ग्राम बड़ी छीपानेर के मध्य नर्मदा नदी पर पुल निर्माण कार्य की वर्तमान स्थिति क्या है? कार्य कब स्वीकृत व प्रांरभ हुआ था व देरी का क्या कारण है? (ख) उक्त पुल निर्माण का कार्य पूर्ण करने की समय-सीमा क्या है व कब तक पुल का निर्माण कार्य पूर्ण कर लिया जावेगा? (ग) प्रश्नांश (क) में अंकित पुल निर्माण पर कुल कितनी राशि व्यय होना है व सम्बन्धित कार्य एजेन्सी को अभी तक कितनी राशि का भुगतान कर दिया गया है। (घ) उक्त पुल निर्माण कार्य की गुणवत्ता जांचें जाने के संबंध कब-कब किस अधिकारी अथवा एजेन्सी द्वारा निरीक्षण किया गया?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) से (घ) विवरण संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
रेल्वे ओवर ब्रिज का निर्माण
[लोक निर्माण]
15. ( क्र. 2127 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधान सभा हरदा क्षेत्रान्तर्गत नगर हरदा, खिरकिया एवं ग्राम भिरंगी में रेल्वे ओवर ब्रिज निर्माण कार्य की प्रचलित योजना की वर्तमान स्थिति क्या है? (ख) ब्रिज निर्माण में राज्य शासन एवं केन्द्र शासन द्वारा कितनी-कितनी राशि व्यय की जाना है व कब तक निर्माण कार्य प्रारंभ कर दिया जावेगा? (ग) क्या सम्बन्धित कार्य एजेन्सी को कार्यादेश जारी कर दिये गये हैं? यदि नहीं, तो कब तक कार्यादेश जारी कर दिये जावेंगे व निर्माण कार्य पूर्ण करने की समय-सीमा क्या-क्या है? (घ) उक्त निर्माण कार्यों के प्रारंभ होने में देरी के लिये कौन जिम्मेदार है? सम्बन्धित जिम्मेदार पर क्या कोई कार्यवाही की जावेगी?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) विधानसभा हरदा क्षेत्रान्तर्गत नगर हरदा में राष्ट्रीय राजमार्ग क्रमांक-59 ए के कि.मी. 147/10 पर स्थित एल.सी. नंबर-2014 पर आर.ओ.बी. प्रस्तावित है। भारत सरकार सड़क परिवहन मंत्रालय एवं राजमार्ग नई दिल्ली द्वारा आर.ओ.बी. हरदा के फिजीबिलिटी स्टडी एण्ड डी.पी.आर. बनाने का कार्य जिन्दल कन्सोर्टियम नई दिल्ली को दिया गया। इनके द्वारा पुनरीक्षित जनरल एरेन्जमेंट ड्राईंग दिनांक 03.03.2017 को रेल्वे विभाग को अनुमोदन हेतु प्रस्तुत की गई है। वर्तमान में खिरकिया एवं ग्राम भिरंगी में रेल्वे ओव्हर ब्रिज का निर्माण कार्य स्वीकृत नहीं है। (ख) प्रश्नांश 'क' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। वर्तमान में निश्चित तिथि बताना संभव नहीं है। (ग) प्रश्नांश 'क' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) प्रश्नांश 'क' के परिप्रेक्ष्य में कोई जिम्मेदार नहीं अत: शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
कृषि विकास की योजनाओं का क्रियान्वयन
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
16. ( क्र. 2131 ) श्री शान्तिलाल बिलवाल : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन/विभाग द्वारा कृषि को उन्नत करने एवं किसानों के कल्याण हेतु अनेक योजनाएं बनाई जाकर उन पर कार्य किये जा रहे हैं? (ख) यदि हाँ, तो झाबुआ जिला अंतर्गत वर्तमान में किन-किन योजनाओं/परियोजनाओं का क्रियान्वयन शासन/विभाग एन.जी.ओ. एवं अन्य विभिन्न एजेंसियों के माध्यम से किया जा रहा है? (ग) उपरोक्त योजनाओं हेतु वर्तमान में बजट स्वीकृत होकर क्या कार्य कराये गये? कितना आवंटन प्राप्त हुआ? कितने कार्य अपूर्ण रहे? (घ) उपरोक्त क्रियान्वित योजनाओं में आवंटन व्यय वर्ष 2013-14, 2014-15 एवं 2015-16 तक की स्थिति से अवगत करावें?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ग) कार्यों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। आवंटन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है।
तालाबों का जीर्णोद्धार
[जल संसाधन]
17. ( क्र. 2309 ) कुँवर विक्रम सिंह : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अता. प्रश्न क्र. 461 दि. 5 दिसम्बर, 2016 के उत्तर में 77 तालाब जल संसाधन विभाग के अंतर्गत बतायें गये? (ख) क्या चंदेल कालीन तालाबों की स्थिति खराब है और उन पर अतिक्रमण कर लिया गया तथा पानी भी बह जाता है? (ग) बुन्देलखण्ड में पानी की समस्या के समाधान हेतु विभाग द्वारा छतरपुर, टीकमगढ़, पन्ना के तालाबों के जीर्णोद्धार हेतु क्या शासन ने कोई योजना बनाई है? (घ) यदि हाँ, तो क्या नहीं तो क्यों?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। कुछ तालाबों के बंधान में मकान इत्यादि का अतिक्रमण लगभग 50 वर्ष पूर्व से होना प्रतिवेदित है। वर्तमान में नवीन अतिक्रमण नहीं किया गया है तथा तालाब से कोई पानी व्यर्थ नहीं जाता है। (ग) एवं (घ) जिला छतरपुर के 03 विकासखण्ड क्रमशः छतरपुर, नौगांव एवं राजनगर के कुल 14 चंदेलकालीन तालाबों के पुनरूद्धार का प्रस्ताव राष्ट्रीय भू-जल प्रबंधन सुधार योजना (NGWMIS) के अंतर्गत भारत सरकार, जल संसाधन विभाग को दिनांक 26.09.2016 को प्रेषित किया गया है। तालाब पुनरूद्धार का अन्य कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं हैं।
सड़क निर्माण की स्वीकृति
[लोक निर्माण]
18. ( क्र. 2339 ) कुँवर विक्रम सिंह : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छतरपुर जिले के राजनगर विधानसभा क्षेत्र के रोडों के निर्माण कार्यों की स्वीकृति हेतु प्रश्नकर्ता द्वारा सचिव लोक निर्माण म.प्र. शासन को दिनांक 9/12/16 को पत्र दिया था? (ख) क्या छतरपुर से बाई पास रोड विक्रमपुर तथा राजनगर से महोबा रोड़ की स्वीकृति राज्य शासन द्वारा दी गई है? (ग) यदि हाँ, तो किस कंपनी द्वारा रोड तैयार कराया जावेगा? प्रशासकीय स्वीकृति सहित उपलब्ध करावें?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। (ग) प्रश्नांश 'ख' के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
अनुदान योजनाओं अंतर्गत भण्डार गृह निर्माण
[उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण]
19. ( क्र. 2577 ) श्री जितेन्द्र गेहलोत : क्या राज्यमंत्री, उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अनुदान योजनांतर्गत पॉली हाउस, नेट हाउस, प्याज भण्डार हाउस निर्माण के क्या प्रावधान है? (ख) रतलाम जिले व विशेषकर आलोट विधानसभा क्षेत्र में वर्ष २०१३ से दिसम्बर २०१६ तक कितने प्रकरण उपरोक्त प्रश्नांश (क) अंतर्गत स्वीकृत हुए? कितने आवेदन आए? कितने प्रकरण लंबित हैं? किस कारण वर्षवार, क्षेत्रवार ब्यौरा दें। (ग) आलोट विधानसभा क्षेत्र में वर्ष २०१७ में पॉली हाउस, प्याज भण्डार गृह, नेट हाउस निर्माण का लक्ष्य क्या है?
राज्यमंत्री, उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण ( श्री सूर्यप्रकाश मीना ) : (क) प्रश्नाधीन योजनाओं के प्रावधान संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। (ग) विधानसभा क्षेत्रवार लक्ष्यों का निर्धारण नहीं किया जाता, अपितु जिलेवार किया जाता है। विभाग के पोर्टल पर ऑनलाईन प्रस्तुत आवेदनों में से जिले हेतु निर्धारित न्यूनतम लक्ष्य उपयोग होने के बाद राज्य स्तर पर पूल से जिले द्वारा लक्ष्य लेकर पात्र कृषकों को प्रथम आओ प्रथम पाओ के आधार पर चयन किया जाता है। प्रश्नांश की योजनाओं में वित्तीय वर्ष 2017-18 के ऑनलाईन लक्ष्य 1 अप्रैल 2017 के बाद उपलब्ध होंगे।
मार्गों की मरम्मत
[लोक निर्माण]
20. ( क्र. 2595 ) डॉ. कैलाश जाटव : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा वर्ष २०१३-१४, २०१४-१५, २०१५-१६ एवं २०१६-१७ में गोटेगांव विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत किस-किस मार्ग के लिए मरम्मत हेतु राशि जारी की गई एवं उक्त राशि में किस-किस मद से क्या-क्या कार्य स्वीकृत कराये गये? सूची उपलब्ध करावें। (ख) वर्तमान में लोक निर्माण विभाग द्वारा विधानसभा क्षेत्रांतर्गत कितनी रोडों का रख-रखाव किया जा रहा है? उन रोडों की वर्तमान में क्या स्थिति है? सूची उपलब्ध करावें।
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'अ' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'ब' अनुसार है।
विश्राम गृहों की मरम्मत
[जल संसाधन]
21. ( क्र. 2652 ) श्री रजनीश सिंह : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जल संसाधन विभाग अंतर्गत जिला सिवनी में कितने विश्राम गृह (रेस्ट हाउस) हैं? कौन-कौन से विश्राम गृह कौन-कौन से अधिकारियों के प्रभार में हैं? नाम एवं पद नाम सहित विधान सभावार विवरण देवें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार इन विश्राम गृहों के रख-रखाव/मरम्मत कार्य के लिये वर्ष 2010 से 2016 तक किन-किन विश्राम गृहों को कितनी-कितनी राशि आवंटित की गई है? आवंटित राशि से क्या-क्या कार्य कराये गये हैं? (ग) क्या विधान सभा क्षेत्र केवलारी अंतर्गत रूमाल जलाशय एवं ढूंटी डेम जलाशय के विश्राम गृह, मरम्मत व रख-रखाव के अभाव में जीर्ण-शीर्ण हो गये हैं? क्या उक्त दोनों विश्राम गृह के मरम्मत कार्य के लिये विभाग द्वारा राशि स्वीकृत नहीं की गई है? यदि हाँ, तो क्यों? क्या शासन की मंशा इन कीमती धरोहरों को नष्ट करने की है?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) एवं (ख) 08 निरीक्षण गृह। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी नहीं। जी हाँ। ढूंटी निरीक्षण गृह का आवश्यक रख-रखाव/मरम्मत का कार्य वार्षिक अनुरक्षण मद में प्राप्त राशि से कराया जाना प्रतिवेदित है। जी नहीं।
फसल बीमा राशि का भुगतान
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
22. ( क्र. 2653 ) श्री रजनीश सिंह : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सिवनी जिले के किसान क्रेडिट कार्ड धारक किसानों को वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में रबी एवं खरीफ की फसलों का बीमा किया गया था? यदि हाँ, तो किस कंपनी द्वारा कितने किसानों का बीमा किया गया था? कंपनी का नाम बतायें एवं उक्त कंपनी द्वारा कितनी राशि का प्रीमियम सिवनी जिले के किसानों से वसूल किया गया था, तहसीलवार जानकारी देवें? (ख) क्या प्रभावित किसानों को बीमा के एवज में क्षतिग्रस्त फसलों की क्षतिपूर्ति का पूर्ण भुगतान कर दिया गया है? यदि हाँ, तो किस मापदण्ड से भुगतान किया गया है? कितनी राशि का भुगतान किया गया है? तहसीलवार बतायें? (ग) क्या केवलारी विधानसभा अन्तर्गत तहसील विकासखण्ड छपारा के प.हं.न 40 के कृषकों से खरीफ (2015-16) फसल की बीमा राशि का भुगतान नहीं किया गया है यदि हाँ, तो क्यों? इसका जिम्मेदार कौन है? जिम्मेवार अधिकारी/कर्मचारी पर क्या कार्यवाही की जावेगी?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) सिवनी जिले के किसान क्रेडिट कार्ड धारक किसानों का वर्ष 2015-16 एवं 2016-17 में रबी एवं खरीफ की फसलों का बीमा एग्रीकल्चर इंश्योरेंस कंपनी ऑफ इंडिया लिमिटेड द्वारा किया गया था। जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) खरीफ 2015 मौसम में सिवनी जिले के लिये कुल क्षतिपूर्ति राशि रू. 900810227 का भुगतान कुल 54047 पात्र कृषकों को किया गया है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। राष्ट्रीय कृषि बीमा योजनांतर्गत क्षतिपूर्ति प्रक्रिया जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। रबी 2015-16 एवं खरीफ 2016 मौसम हेतु क्षतिपूर्ति प्रक्रियाधीन है। (ग) खरीफ 2015 मौसम में तहसील छपारा में सोयाबीन फसल हेतु 41 पात्र कृषकों को कुल दावा राशि रू.1534929 का भुगतान नोडल बैंकों के माध्यम से किया गया है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
गृह निर्माण संस्थाओं की अनियमितताओं के बारे में
[सहकारिता]
23. ( क्र. 3058 ) श्री महेन्द्र सिंह कालूखेड़ा : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के प्रश्न दिनांक 5 दिसम्बर 2016 को अतारांकित प्रश्न संख्या 1, (क्रमांक 33) के उत्तर में 2179 गृह निर्माण संस्थाओं में से 1100 में अनियमितताओं की जाँच की प्रगति बताते हुए अभी तक का विवरण दें। खासतौर से रोहित गृह निर्माण संस्था में 2004-05 से आज तक ऑडिट नहीं होने तथा 1500 वैध सदस्यों के बाद बने अवैध सदस्यों की सदस्यता व अभी तक हुई सभी कार्यवाही निरस्त करने की शिकायतों पर शासन ने क्या कार्यवाही की? (ख) रोहित गृह निर्माण सहकारी संस्था मर्यादित भोपाल के बारे में श्री जे.के. जैन 272 मारवाडी रोड भोपाल तथा अन्य किस-किस ने मुख्य सचिव 03.10.2013 व वर्तमान मुख्य सचिव तथा सहकारिता विभाग के अधिकारियों को क्या शिकायतें कब-कब पिछले 5 वर्षों में किस-किस व्यक्ति ने की? नाम पते सहित कार्यवाही विवरण दें। (ग) वर्ष 2003 में सहकारी सोसायटी अधिनियम में संशोधन कर अध्याय 8 (क) सहकारी गृह निर्माण सहकारी संस्थाओं के लिये विशेष उपबंध काँग्रेस के समय जोड़ा गया तथा इसके प्रावधान दिनांक 30 जनवरी 2003 को लागू हुए उसका विवरण देते हुए बताएं कि इन प्रावधानों की अनदेखी क्यों की गई? (घ) कब तक उपरोक्त शिकायतों की जाँच जैसा कि मंत्री जी ने एस.टी.एफ. से कराने की की थी, कराई जाएगी? (ड.) रोहित गृह निर्माण के सदस्यों व पदाधिकारियों के नाम तथा पता देवें।
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) सत्र दिसम्बर 2016 के अतारांकित प्रश्न क्रमांक 33 में 92 गृह निर्माण सहकारी संस्थाओं के द्वारा हितग्राहियों के साथ प्लाट आवंटन में भ्रष्टाचार व अनिमितताओं के कारण मध्यप्रदेश सहकारी सोसायटी अधिनियम 1960 के अध्याय 8 (क) के तहत 123 प्रकरण दर्ज किये गये थे, 94 प्रकरणों का निराकरण किया गया, 29 प्रकरण निराकरण हेतु प्रक्रियाधीन है। रोहित गृह निर्माण सहकारी संस्था मर्यादित भोपाल के अभिलेख संस्था प्रशासक को प्राप्त न होने के कारण शेष प्रश्नांश पर कार्यवाही संभव नहीं है। (ख) श्री जे.के. जैन तथा अन्य व्यक्तियों के द्वारा पिछले 05 वर्षों में की गई शिकायतों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र अनुसार है। (ग) वर्ष 2003 में मध्यप्रदेश सहकारी सोसायटी अधिनियम में संशोधन कर जोडे गये अध्याय 8 (क) के प्रावधानों का पालन करते हुये उत्तरांश ''क'' अनुसार दोषी पदाधिकारियों के विरूद्ध कार्यवाही की गई है, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) गंभीर अनियमितता करने वाली गृह निर्माण सहकारी संस्थाओं के विरूद्ध मध्यप्रदेश सहकारी सोसायटी अधिनियम 1960 में वर्णित प्रावधानों के अन्तर्गत विभिन्न प्रकार के अपराधों एवं उनके लिये निर्धारित शास्तियों हेतु विभागीय अधिकारियों को अधिकार प्रत्यायोजित किये गये है। (ड.) रोहित गृह निर्माण सहकारी संस्था मर्यादित भोपाल में संचालक मण्डल के स्थान पर प्रशासक नियुक्त है, प्रशासक को संस्था के अभिलेख प्राप्त न होने से जानकारी दिया जाना संभव नहीं है।
बांध के ओवरफ्लो के कारण नुकसान का मुआवजा
[जल संसाधन]
24. ( क्र. 3420 ) श्रीमती पारूल साहू केशरी : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सागर जिले के सुरखी विधान सभा क्षेत्र के अंतर्गत टिकारी बांध के ओवरफ्लो पानी के तेज बहाव के कारण ग्राम खमकुआ में किसानों को फसलों एवं खेती का नुकसान हो गया था? जिसका स्थल निरीक्षण नायब तहसीलदार सुरखी द्वारा किया जाकर कलेक्टर सागर को 07 अगस्त 2016 को प्रतिवेदन प्रस्तुत कर दिया था? (ख) यदि हाँ, तो क्या नायब तहसीलदार सुरखी द्वारा अपने प्रतिवेदन में बांध के ओवरफ्लो के कारण मौके पर उपस्थित कृषकों को मौसम के खुलते ही सर्वे कराकर फसलों एवं खेती के नुकसान का मुआवजा दिलाये जाने का ओवरफ्लो का पानी नहर बनाकर नाले में पानी डाले जाने का एवं पुल बनवाये जाने का आश्वासन देकर प्रतिवेदन में लेख किया गया था? (ग) यदि हाँ, तो प्रश्नांश (क) एवं (ख) के परिप्रेक्ष्य में बतावें कि क्या किसानों को उनके नुकसान का मुआवजा दिया जा चुका है और क्या टिकारी बांध के ओवरफ्लो पानी को नाले में डाले जाने एवं पुल बनवाये जाने की दिशा में भी कोई कार्यवाही की गयी है? (घ) यदि हाँ, तो क्या और कब और यदि नहीं, तो क्यों? कारण बतावें? क्या किसानों को विगत वर्ष की भांति इस वर्ष की नुकसान उठाना पड़ेगा? यदि नहीं, तो पीड़ित किसानों को कब तक न्याय मिल जावेगा?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) जी हाँ। (ख) कलेक्टर जिला सागर द्वारा उपलब्ध कराये गये उत्तर अनुसार नायब तहसीलदार सुरखी द्वारा बाँध के ओवरफ्लो के कारण मौके पर उपस्थित कृषकों को मौसम के खुलते ही सर्वे कराकर फसलों एवं खेती के नुकसान का मुआवजा दिलाये जाने का आश्वासन दिया गया था। ओवरफ्लो का पानी नहर बनाकर नाले में डाले जाने एवं पुल बनवाये जाने का आश्वासन नहीं दिया गया था, किन्तु यह माँग कृषकों द्वारा की गई थी, जिसका प्रतिवेदन में उल्लेख था। (ग) एवं (घ) कलेक्टर जिला सागर द्वारा उपलब्ध कराये गये उत्तर अनुसार ग्राम खमकुआँ के 65 कृषकों को रू. 2,62,790/- की राशि स्वीकृत कर ई-पेमेंट के माध्यम से कृषकों के खाते में भुगतान करने की कार्यवाही की जाना प्रतिवेदित है। टिकारी बाँध के ओवरफ्लो को मूल नाले में प्रत्यावर्तित करने के लिये एवं पूर्व में ओवरफ्लो को जिस नाले में डाला गया है उस पर पुल बनाने हेतु सर्वेक्षण कार्य का प्राक्कलन तैयार किया जाना प्रतिवेदित है। किसानों को अगली वर्षा में फसल नुकसान न हो इसके लिये आवश्यक व्यवस्था करने का प्रयास किया जायेगा।
ग्राम घुघरी का कटाव रोकना
[जल संसाधन]
25. ( क्र. 3537 ) श्री मोती कश्यप : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) तहसील ढीमरखेड़ा के ग्राम घुघरी की किसी नदी से हुए कटाव से कितने मार्ग, मकान, धार्मिक स्थल और कितने मीटर तट किस रूप में प्रभावित हुए हैं? (ख) क्या वर्ष 2014 से 2017 की किन तिथियों में प्रश्नकर्त्ता और किन अधिकारियों ने प्रश्नांश (क) स्थल का कितनी बार निरीक्षण कर कोई निदान प्रस्तावित किया है? (ग) क्या दिनांक 11-9-2016 को किसी ग्राम के कार्यक्रम में मा. मुख्यमंत्री द्वारा प्रश्नांश (क), (ख) के संबंध में की गई घोषणा और दिनांक 27-12-2016 को ढीमरखेड़ा विकासखण्ड की समीक्षा बैठक में आश्वासन अनुसार विभागीय कार्यपालन यंत्री ने प्रश्नकर्त्ता से कोई चर्चा कर किसी लागत की कोई ऐसी योजना प्रस्तावित की है, कि जो कटाव को पाटकर ग्राम तल से समतल बनायी जा सके? (घ) क्या किन्हीं खसरों की किसी रकबे की भूमि से जल प्रवाह प्रत्यावर्तन पर संबंधित किन्हीं कृषकों से कोई सहमति पत्र प्राप्त किया गया है और उनकी क्षति की पूर्ति हेतु विवादहीन किस प्रकार की योजना बनायी है और क्या किसी उच्चाधिकारियों द्वारा कभी परीक्षण कर अनुमोदित किया है? (ड.) प्रश्नांश (क) से (घ) योजना को कब तक स्वीकृत कर क्रियान्वित कर दिया जावेगा?
जल संसाधन
मंत्री ( डॉ.
नरोत्तम
मिश्र ) : (क) नायब
तहसीलदार, उमरियापान
जिला-कटनी से
प्राप्त
प्रतिवेदन की
प्रति संलग्न
परिशिष्ट अनुसार
है। (ख) दिनांक
02.04.2015
को प्रभारी
उपयंत्री श्री
आर.के.परौहा
एवं दिनांक 28.04.2015
को श्री
पी.के.शर्मा
अधीक्षण
यंत्री, जल संसाधन
मण्डल जबलपुर, श्री
आर.के.सबनानी
कार्यपालन
यंत्री, श्री
पी.के.जैन
अनुविभागीय
अधिकारी, श्री
आर.के.परौहा
उपयंत्री एवं
श्री
ए.के.पाण्डेय
उपयंत्री
द्वारा
संयुक्त स्थल
निरीक्षण
किया गया। माननीय
विधायक महोदय
द्वारा
दिनांक 30.08.2016 को स्थल
निरीक्षण
किया गया
जिसमें
प्रभारी उपयंत्री
उपस्थित थे। तकनीकी
प्रस्ताव
परीक्षणाधीन
है। (ग) जी
हाँ। (घ) एवं (ड.)
जी हाँ। 06 कृषकों से
सहमति पत्र प्राप्त
किया जाना
प्रतिवेदित
है। प्रस्ताव
परीक्षणाधीन
होने के कारण
समय-सीमा
बताना संभव
नहीं है।
परिशिष्ट
- ''आठ''
रीवा जिले में निर्मित नहरों की जाँच बावत्
[जल संसाधन]
26. ( क्र. 3553 ) श्रीमती शीला त्यागी : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दिनांक 11/03/2016 के प्रश्न क्रमांक 2391 में चाही गयी जानकारी में जिन कार्यों के सम्बन्ध में कार्य प्रगति में है कि जानकारी दी गई है, उन कार्यों की जानकारी संविदाकारवार, कार्यवार देवें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में कितने कार्य करारनामे की शर्तों के अनुसार नहीं किये गये है, उनकी सूची कार्यवार देवें। (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में कौन अधिकारी अथवा संविदाकार दोषी हैं, दोषी के विरूद्ध कौन सी दण्डात्मक कार्यवाही कब तक की जावेगी।
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) निरंक। (ग) उत्तरांश-'ख' अनुसार कोई अधिकारी/संविदाकार दोषी नहीं है। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होते हैं।
नव गठित जिलों में जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक की स्थापना करना
[सहकारिता]
27. ( क्र. 3595 ) श्री दिलीप सिंह परिहार : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला मुख्यालय स्तर पर जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक की स्थापना के लिये जिले में कितने पंजीकृत किसानों की संख्या का होना आवश्यक है? उक्त आशय के यदि कोई नियम शासन द्वारा जारी किये गये हैं तो प्रति उपलब्ध कराई जावे। (ख) दिनांक 01.04.1999 से प्रदेश में नवगठित जिलों में से किन-किन जिलों के द्वारा अविभाजित जिलों से पृथक जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक की स्थापना करने बाबत प्रस्ताव शासन को कब-कब प्राप्त हुए हैं तथा प्राप्त प्रस्तावों पर शासन द्वारा अब तक क्या कार्यवाही की गई? (ग) नव गठित जिलों में अब तक जिला मुख्यालय स्तर पर जिला केन्द्रीय सहकारी बैंक की स्थापना नहीं होने के कारण क्या प्रशासनिक एवं दूरस्थ क्षेत्र के किसानों को बैंक संबंधी कार्यों के निराकरण के लिये अनावश्यक रुप से असुविधाओं का सामना करना पड़ता है? यदि हाँ, तो क्या शासन किसानों की समस्याओं को दृष्टिगत रखते हुए कब तक नवगठित जिलों के जिला मुख्यालय पर पृथक से जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक की स्थापना करेगा?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक के गठन हेतु पंजीकृत किसानों की संख्या की आवश्यकता के संबंध में कोई प्रावधान नहीं है। प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मुरैना से नवगठित श्योपुर जिले में बैंक गठन, जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक खरगोन से नवगठित बड़वानी जिले में बैंक गठन तथा जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक होशंगाबाद से नवगठित हरदा जिले में बैंक गठन का प्रस्ताव आयुक्त सहकारिता एवं पंजीयक को प्राप्त हुआ था। प्रस्ताव के परीक्षण उपरांत तीनों प्रस्ताव भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा निर्धारित मापदंड की पूर्ति नहीं करने से अमान्य किये गये। (ग) जी नहीं, नवगठित जिलों में वर्तमान जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक की शाखाएं होने तथा नोडल अधिकारी नियुक्त करने से कृषकों को सुविधाएं नवगठित जिले में उपलब्ध कराई जा रही है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय निर्मित भवनों का विभागवार संचालन
[जल संसाधन]
28. ( क्र. 3651 ) श्री रामपाल सिंह : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शहडोल जिले के ब्यौहारी नगर परिषद् के वार्ड क्र ०९ में बहुउद्देशीय बाण सागर परियोजना के विस्थापितों को प्लाट आवंटित कर न्यू बरौंधा नामक बस्ती बसायी गयी है और उक्त बस्ती में चिकित्सालय, विद्यालय, छात्रावास सहित अन्य शासकीय भवन निर्मित हैं? (ख) यदि प्रश्नांश (क) हाँ तो उक्त बस्ती में उपरोक्त भवन किस विभाग द्वारा संचालित कराये जा रहे हैं? प्रत्येक भवन कितनी राशि व्यय कर कब निर्मित कराये गए थे और उक्त भवन प्रश्न दिनांक तक संबंधित सुविधा हेतु संचालित कराये जा रहे हैं? यदि नहीं, तो क्यों और कब तक संचालित कराये जावेंगे?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) जी हाँ। जी हाँ। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। निर्मित भवनों को जल संसाधन विभाग द्वारा दिनांक 01.09.2011 को नगर परिषद् ब्यौहारी को हस्तान्तरित कर दिया गया है। संबंधित भवनों में आवश्यक सुविधाओं का संचालन करने का दायित्व जिला प्रशासन/नगर परिषद् ब्यौहारी के अंतर्गत होने के कारण जानकारी दी जाना संभव नहीं है। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होते हैं।
जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मर्यादित गुना के चेयरमेन की नियुक्ति
[सहकारिता]
29. ( क्र. 3711 ) श्रीमती ममता मीना : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला सहकारी बैंक मर्यादित गुना में निर्वाचित चेयरमेन का पद कब से रिक्त है? रिक्त चेयरमेन पद की पूर्ति हेतु निर्वाचन कब तक कराया जावेगा? पूर्व चेयरमेन के निधन दिनांक से प्रश्न दिनांक तक निर्वाचन क्यों नहीं कराया गया है? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार चेयरमेन का पद रिक्त होने के कारण शासन द्वारा संबंधित जिले के कलेक्टर को अस्थायी रूप से कब तक के लिये बैंक का चेयरमेन बनाया गया है? क्या यह सहकारी समितियों के निर्वाचन संबंधी प्रावधानों के अनुसार तर्क संगत है अथवा नहीं? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) अनुसार जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मर्यादित गुना के पूर्व चेयरमेन की मृत्यु दिनांक के पश्चात निर्वाचित समिति सदस्यों के बीच से अध्यक्ष का निर्वाचन न कराये जाने के लिये दोषी कौन है? दोषी अधिकारियों के विरूद्ध शासन क्या कार्यवाही करेगा? (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार चेयरमेन का निर्वाचन कब तक कराएगा एवं निर्वाचन न करने वाले दोषी अधिकारियों के विरूद्ध शासन कब तक कार्यवाही करेगा?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
खाद बीज वितरण
[सहकारिता]
30. ( क्र. 3850 ) श्री सुदेश राय : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) यदि किसी किसान की भूमि तथा उसका निवास स्थान अलग-अलग जिले में है तो खाद बीज कहाँ से उपलब्ध कराया जाता हैं? (ख) किसानों को वितरण किये जाने हेतु सोसायटी को खाद बीज का आवंटन किस आधार पर होता है तथा इसकी परिधि क्या होती है और वही किसान जब सोसायटी की परिधि में आता है किन्तु वह किसी अन्य जिले में निवास करता है तो उसको खाद बीज से वंचित क्यों किया जाता है, जबकि उसकी कृषि भूमि उसी सोसायटी की परिधि में आती है? (ग) विगत एक वर्ष में विकासखण्ड सीहोर में ऐसे कितने कृषक हैं जिनकी खेती विकासखण्ड सीहोर में है किन्तु उनका निवास स्थान अन्य जिले में है तथा वह खाद बीज से वंचित रह गये हैं? ग्रामवार संख्यात्मक जानकारी बतावें।
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) प्राथमिक कृषि साख सहकारी संस्थाओं की उपविधि क्रमांक 5 (2) (i) के अनुसार किसान जिस सहकारी संस्था के कार्यक्षेत्र में निवास करता है उसी संस्था का सदस्य बनाया जा सकता है एवं उसी संस्था से के.सी.सी. स्वीकृत होकर खाद, बीज का ऋण प्राप्त कर सकता है। इसके अतिरिक्त प्राथमिक कृषि साख सहकारी संस्थाएं अन्य प्राथमिक कृषि साख सहकारी संस्थाओं को परमिट जारी कर सदस्य कृषक को खाद, बीज उपलब्ध करा सकती है। (ख) सदस्य किसानों को खाद, बीज ऋणमान के आधार पर उनकी कृषि भूमि को देखते हुये उपलब्ध कराया जाता है तथा संस्था को मांग अनुसार खाद, बीज उपलब्ध कराया जाता है। प्राथमिक कृषि साख सहकारी संस्थाओं अपने सदस्यों को खाद, बीज उपलब्ध कराती है। शेष उत्तरांश 'क' अनुसार। (ग) सीहोर विकासखंड में अधीक्षक भू-अभिलेख कार्यालय के अभिलेख अनुसार कुल 44,639 कृषक है, जिनमें से प्राथमिक कृषि साख सहकारी संस्थाओं के कायक्षेत्र के स्थायी निवासी कृषक 41,223 को सदस्य बनाया गया है, जिन्हें नियमानुसार खाद, बीज उपलब्ध कराया जाता है। ऐसे कृषक जिनकी भूमि विकासखंड सीहोर में है, निवास अन्य जिले में करते हैं तथा खाद, बीज से वंचित रह गये हैं, की जानकारी उपलब्ध कराया जाना संभव नहीं है।
मकरोनिया वाया सिविल लाईन मार्ग निर्माण
[लोक निर्माण]
31. ( क्र. 3932 ) श्री शैलेन्द्र जैन : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या माननीय मुख्यमंत्री द्वारा सागर जिले के मकरोनिया वाया सिविल लाईन जीरो माईल्स तक के मार्ग के मजबूतीकरण एवं सौन्दर्यीकरण की घोषणा की गई थी? (ख) प्रश्नांश (क) प्रस्तावित मार्ग के मजबूतीकरण की लम्बाई एवं लागत कितनी है? सौन्दर्यीकरण की लागत कितनी है तथा कौन-कौन से घटक शामिल किये गये हैं? (ग) प्रश्नाधीन कार्यों की स्वीकृति कब तक प्रदान की जायेगी?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। वर्तमान में समय-सीमा बताना संभव नहीं।
संजय ड्राइव मार्ग का उपयोग
[लोक निर्माण]
32. ( क्र. 3933 ) श्री शैलेन्द्र जैन : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सागर विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत संजय ड्राइव मार्ग का उपयोग जिला चिकित्सालय, मेडिकल कॉलेज, विश्वविद्यालय, मुख्य बस स्टैण्ड, बीड़ी कामगार अस्पताल, संभाग एवं जिले के प्रमुख कार्यालयों के साथ-साथ यात्री बसों एवं अन्य वाहनों के आवागमन में किया जा रहा है, जिससे इस मार्ग पर अत्यधिक वाहनों का दबाव बना हुआ है? (ख) क्या शासन संजय ड्राइव के बहुउपयोगी मार्ग पर यात्री बसों, अन्य वाहनों तथा पैदल राहगीरों के आवागमन को सुरक्षित बनाये जाने को लेकर टू-लेन मार्ग के रूप में उन्नयन कराये जाने पर विचार करेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ, जी हाँ। (ख) जी नहीं। प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। मार्ग के टू लेन चौड़ीकरण हेतु पर्याप्त भूमि उपलब्ध नहीं है।
क्षतिग्रस्त सड़कों का सुधार
[लोक निर्माण]
33. ( क्र. 4051 ) डॉ. योगेन्द्र निर्मल : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र 112 अंतर्गत ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्र में वर्तमान में कौन-कौन सी सड़कें क्षतिग्रस्त हैं? (ख) क्षतिग्रस्त सड़कों की कितनी-कितनी राशि का प्राक्कलन तैयार किया गया है? (ग) क्षतिग्रस्त सड़कों का कब तक सुधार किया जावेगा ताकि आम जनता को आवागमन में सुविधा हो सके?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) विस्तृत जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' एवं 'अ-1' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' एवं 'अ-1' अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। म.प्र. सड़क विकास निगम के अंतर्गत मार्गों का निर्माण निर्धारित समय-सीमा में पूर्ण कराया जाना प्रस्तावित है।
पी.आई.यू. द्वारा निर्माण कार्य
[लोक निर्माण]
34. ( क्र. 4052 ) डॉ. योगेन्द्र निर्मल : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बालाघाट जिले की विधानसभा क्षेत्र वारासिवनी-खैरलांजी के नगर एवं ग्रामीण क्षेत्रों में शासन द्वारा परियोजना क्रियान्वयन इकाई (पी.आई.यू.) विभाग में वर्ष 2013-14 से प्रश्न दिनांक तक कोई निर्माण कार्य स्वीकृत किये गये हैं? (ख) यदि हाँ, तो उक्त वर्षों में लोक निर्माण विभाग (पी.आई.यू.) द्वारा निर्माण कार्य कितनी-कितनी लागत के करवाये गये हैं वर्षवार निर्माण कार्य के नाम, स्थान का नाम, लागत राशि सहित जानकारी उपलब्ध करावें? (ग) उक्त निर्माण कार्यों की वर्तमान स्थिति क्या है? क्या सभी कार्य पूर्ण हो गये हैं? (घ) यदि नहीं, तो कौन-कौन से कार्य अधूरे पड़े हैं वर्षवार जानकारी उपलब्ध करावे? उक्त कार्य अधूरे रहने का क्या कारण है? अधूरे कार्य कब तक पूर्ण करा लिये जावेंगे?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) से (घ) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
बलराम तालाब निर्माण
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
35. ( क्र. 4070 ) श्री राजेन्द्र फूलचंद वर्मा : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र में 2016-17 में कितने बलराम तालाबों की स्वीकृति हुई? कितने राशि जारी की गई? कितने बलराम तालाब बन चुके हैं? विकासखण्डवार जानकारी देवें। (ख) क्या बलराम तालाबों के निर्माण किये बिना ही राशि निकाल ली गई तथा बलराम तालाब आज दिनांक तक नहीं बन पाया? यदि हाँ, तो कितने बलराम तालाब हैं जो आज दिनांक तक नहीं बन पाए, हितग्राही के नाम व पंचायत के नाम सहित जानकारी देवें। (ग) सत्र 2016-17 में सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र में कितने बलराम तालाबों की स्वीकृति हुई है?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र में वर्ष 2016-17 में नवीन बलराम तालाबों की स्वीकृति जारी नहीं की गई है, अपितु सोनकच्छ विधानसभा क्षेत्र के लिये राशि रू. 24,04,400 जारी की जाकर पूर्व वर्षों के 56 अपूर्ण बलराम तालाबों को पूर्ण किया गया है। विकासखण्डवार जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। शेष का प्रश्न ही नहीं है। (ग) वर्ष 2016-17 में नवीन बलराम तालाबों की स्वीकृति जारी नहीं की गई है।
दलौदा मंडी को स्वतंत्र दर्जा
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
36. ( क्र. 4694 ) श्री यशपालसिंह सिसौदिया : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मंदसौर, रतलाम, नीमच जिले में कितनी उप मंडियों को स्वतंत्र दर्जा प्राप्त मंडी कब-कब घोषित कर दिया गया है? (ख) क्या मंदसौर दलौदा उपमंडी पूर्ण रूप से स्वतंत्र दर्जा प्राप्त कर चुकी है? यदि हाँ, तो कब से? (ग) क्या दलौदा मंडी को मंदसौर मंडी से आस्तियाँ एवं दायित्व बंटवारे में धन राशी अपेक्षित थी? यदि हाँ, तो कितनी? शासन ने कौन से वर्ष, दिनांक को राशि स्वीकृति का आदेश जारी किया? आदेश की प्रति उपलब्ध करायें। (घ) क्या राशि दलौदा मंडी को प्राप्त हो गई है? यदि नहीं, तो विलम्ब का कारण बतायें? विलम्ब के लिए कौन अधिकारी दोषी है?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) मन्दसौर, जिले की कृषि उपज मंडी समिति मन्दसौर की उपमंडी दलौदा, शामगढ़ की उपमंडी गरोठ एवं सुवासरा की उपमंडी सीतामऊ को राज्य शासन की अधिसूचना से स्वतंत्र मंडी घोषित किया गया है। जिला रतलाम एवं नीमच के अंर्तगत किसी भी उपमण्डी को स्वतंत्र मंडी घोषित नहीं किया गया है। (ख) जी हाँ। कृषि उपजमंडी समिति मन्दसौर जिला-मंदसौर की उपमंडी दलौदा को राज्य शासन की अधिसूचना दिनांक 27.08.2012 से स्वतंत्र मंडी का दर्जा दिया जा चुका है। (ग) जी हाँ। दलौदा मंडी को मन्दसौर मंडी से बंटवारे में धनराशि रूपये 6,01,88,592/- अपेक्षित थी। म.प्र. शासन, किसान कल्याण तथा कृषि विकास विभाग द्वारा वर्ष 2016 दिनांक 20 अक्टूबर को स्वीकृति आदेश जारी किये गये, आदेश की प्रति जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) जी हाँ।
भोपाल के जम्बूरी मैदान में आयोजित हितग्राही सम्मेलन
[जनसंपर्क]
37. ( क्र. 4701 ) श्री रामनिवास रावत : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या दिनांक 04-12-16 को भोपाल के जम्बूरी मैदान में हितग्राही सम्मेलन/मेला/प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया गया था? यदि हाँ, तो उक्त आयोजन में किस-किस योजना के हितग्राहियों को आमंत्रित किया गया था एवं इस आयोजन का उद्देश्य क्या था? हितग्राहियों को इस आयोजन से क्या लाभ प्राप्त हुआ? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार भोपाल में हुए आयोजन में किन-किन जिलों से किन-किन योजनाओं के कितने-कितने हितग्राही सम्मिलित हुए?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) एवं (ख) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
उपपंजीयक सहकारी संस्थाएं छतरपुर के विरूद्ध कार्यवाही
[सहकारिता]
38. ( क्र. 4842 ) श्रीमती रेखा यादव : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला छतरपुर में वर्ष 2013 से प्रश्न दिनांक तक मध्यप्रदेश सहकारी सोसायटी अधिनियम 1960 की धारा 55 (2) , 56 (3) , 53, 64 एवं 64 (2.5) के अतंर्गत कितने प्रकरण लंबित व दर्ज किये गये? आवेदक दिनांक व प्रकरणवार सूची दें? (ख) क्या मध्यप्रदेश सहकारी सोसायटी अधिनियम 1960 के अतंर्गत न्यायालय उप पंजीयक को प्रकरणों में एक पक्षीय स्थगन एवं निर्णय के अधिकार प्राप्त हैं यदि हाँ, तो कितने प्रकरणों में एक पक्षीय बगैर अनावेदक के जबाव प्राप्त कर निर्णय पारित किये गये हैं? सूची दें। (ग) उक्त अधिकारिता विहीन आदेश पारित करने वाले अधिकारी के विरूद्ध क्या शासन द्वारा कोई कार्यवाही की जा रही है? यदि हाँ, तो कब तक?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) दर्ज व लबित प्रकरणों की धारावार संख्या निम्नानुसार है -
धारा |
दर्ज प्रकरण |
लंबित प्रकरण |
धारा 55 (2) |
30 |
06 |
धारा 64 |
06 |
02 |
धारा 64 (2) (पाँच) |
13 |
03 |
धारा 53 |
160 |
05 |
धारा 56 (3) |
339 |
125 |
प्रकरणवार विवरण सहित सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) जी हाँ। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- 2 अनुसार है। (ग) प्रश्नांश "ख" के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में कार्यवाही की आवश्यकता नहीं।
छतरपुर जिल के उपपंजीयक के विरूद्ध कार्यवाही
[सहकारिता]
39. ( क्र. 4843 ) श्रीमती रेखा यादव : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बड़ामलहरा विधानसभा क्षेत्र अतंर्गत उपार्जन करने वालों समितियों के विरूद्ध क्या कोई शिकायत मध्यप्रदेश शासन सचिव सहकारिता को की गई थी? यदि हाँ, तो उक्त शिकायत को जाँच प्रतिवेदन का विवरण देवें? (ख) जाँचकर्ता अधिकारी द्वारा उपार्जन करने वाले दोषी अधिकारियों कर्मचारियों के विरूद्ध कार्यवाही हेतु क्या उल्लेख किया गया था? यदि हाँ, तो उक्त कर्मचारियों के विरूद्ध कार्यवाही की गई? (ग) क्या उपार्जन केन्द्रों के समय जिले के उपपंजीयक एवं प्रशासक जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मर्यादित छतरपुर एक ही अधिकारी थे और उनके द्वारा कमीशन खोरी कराकर संस्थाओं में अवैधानिक खर्चें डलवाकर कमीशन की राशि को हड़पा गया? उक्त दोषी कर्मचारियों के साथ-साथ जिले के उप पंजीयक एवं तत्कालीन प्रशासक के विरूद्ध क्या कार्यवाही प्रस्तावित की गई? यदि नहीं, तो कब तक की जावेगी?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जी हाँ, दिनांक 07.09.2015 को प्रश्नकर्ता माननीय विधायक द्वारा शिकायत की गई थी, विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ, जी हाँ। (ग) जी हाँ, जी नहीं, प्रश्नांश 'क' में उल्लेखित शिकायत में ऐसा कोई उल्लेख नहीं है। उप पंजीयक छतरपुर द्वारा संस्थाओं के दोषी कर्मचारियों को राशि जमा करने हेतु पत्र जारी किये गये तथा संस्था के संचालक मण्डल को कर्मचारियों के विरूद्ध सेवा नियमों के अंतर्गत कार्यवाही हेतु लेख किया गया, मध्यप्रदेश सहकारी सोसाइटी अधिनियम 1960 की धारा 58 'बी' के अंतर्गत प्रकरण तैयार करने हेतु अंकेक्षकों को निर्देशित किया गया है, बैंक के तत्कालीन प्रभारी महाप्रबंधक एवं शाखा प्रबंधक घुवारा के विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही हेतु जिला सहकारी केंद्रीय बैंक मर्या. छतरपुर को लिखा गया। उप पंजीयक एवं तत्कालीन प्रशासक के संबंध में प्रश्नांकित शिकायत एवं जाँच प्रतिवेदन में ऐसा कोई उल्लेख नहीं होने से उनके विरूद्ध कोई कार्यवाही प्रस्तावित नहीं की गई। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय बंगलों की साज-सज्जा के नाम पर शासन की राशि का दुरूपयोग
[लोक निर्माण]
40. ( क्र. 5021 ) श्री आरिफ अकील : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या माननीय मुख्यमंत्री सहित मंत्रीगण के शासकीय बंगलों की साज-सज्जा के नाम पर शासन की राशि का दुरूपयोग किया गया है? (ख) यदि नहीं, तो वर्ष 2014 से प्रश्न दिनांक की स्थिति में किस-किस उत्सव-त्यौहारों व अन्य आयोजन के शुभावसर पर शासन की कितनी-कितनी राशि व्यय कर प्रदेश के माननीय मुख्यमंत्री सहित मंत्रीगण के शासकीय बंगलों की रंगाई, पुताई, लाईट/डेकोरेशन व अन्य साज-सज्जा के नाम पर किस-किस वर्ष में कितनी-कितनी राशि व्यय की गई मुख्यमंत्री, मंत्रीगण के नाम सहित वर्षवार बतावें?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी नहीं। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
कीटनाशक में अनियमितता हेतु गठित जाँच टीम की रिपोर्ट
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
41. ( क्र. 5063 ) श्री कमलेश्वर पटेल : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या किसानों को अनुदान पर कीटनाशक, दवाइयां उपलब्ध कराई जाती हैं? यदि हाँ, तो सीधी एवं सिंगरौली जिले हेतु प्रश्न दिनांक तक क्रय एवं प्रदाय कीटनाशक का विवरण दें। (ख) गंभीर अनियमितता के कारण एम.पी. स्टेट एग्रो के आर्डर को समाप्त कर डी.एम.ओ. को भंडार की जिम्मेदारी सौंपी जाने का कारण व शासकीय नियम बतायें। (ग) क्या दिसम्बर 2016 में संयुक्त संचालक किसान कल्याण तथा कृषि विकास रीवा द्वारा जाँच टीम का गठन किया गया था? यदि हाँ, तो जाँच के परिणाम व की गई कार्यवाही का विवरण दें।
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जी हाँ। सीधी एवं सिंगरौली में वर्ष 2016-17 में प्रश्न दिनांक तक प्रदाय कीटनाशक की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र एक एवं दो अनुसार है। (ख) सीधी एवं सिंगरौली जिलों में किसानों को अनुदान पर कीटनाशक दवाइयों के वितरण के कार्य में अनियमितता की जाँच के आदेश संचालनालय किसान कल्याण तथा कृषि विकास द्वारा जारी किए गए हैं। (ग) जी हाँ, कार्यवाही प्रक्रियाधीन है।
पेंच व्यपवर्तन योजना का पानी कुरई विकासखंड क्षेत्र में पहुंचाना
[जल संसाधन]
42. ( क्र. 5082 ) श्री कमल मर्सकोले : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी जिले में महत्वांकाक्षी पेंच व्यपवर्तन योजना से पानी नहरों के माध्यम से पहुंचाया जा रहा है, क्या सिवनी जिले के आदिवासी क्षेत्र कुरई विकासखंड के किसानों को इस योजना का लाभ मिल सकेगा? इसके लिए क्या भविष्य में कोई कार्ययोजना है? (ख) सिवनी जिले में बैनगंगा नदी का उद्गम स्थल ग्राम मुंडारा है जहां से होकर हिर्री नदी भी प्रवाहित होती है, क्या इस नदी के माध्यम से पेंच व्यपवर्तन योजना के तहत पानी डाला जाकर सुकला डेम तक पहुंचाया जा सकता है? इस कार्य के लिए विभाग के पास कोई कार्ययोजना है? यदि है तो आगे क्या प्रयास होने जा रहा है?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) जी हाँ। जी नहीं। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होते हैं। (ख) जी हाँ। पेंच परियोजना का पानी सुकता बाँध तक पहुँचाने का कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होते हैं।
आत्मा योजना के तहत कराये गए कार्य
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
43. ( क्र. 5083 ) श्री कमल मर्सकोले : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी जिले में कृषि विभाग अंतर्गत आत्मा योजना के तहत वर्ष 2014 से वर्तमान तक कृषक प्रशिक्षण, कृषक भ्रमण, कृषि विज्ञान मेला, किसान संगोष्ठि, प्रदर्शन, फार्म स्कूल कलाजत्था के माध्यम से किसानों तक कृषि की नवीनतम तकनीक पहुंचाने हेतु कौन-कौन से कार्य विभागीय तौर पर किये गये है? इन कार्यों हेतु वर्षवार कितना बजट प्राप्त हुआ था? (ख) वर्ष 2014 से वर्तमान तक कृषक प्रशिक्षक, कृषक भ्रमण, कृषि विज्ञान मेला, किसान संगोष्ठि, प्रदर्शन, कार्यक्रम के नाम पर विभाग द्वारा सिवनी जिले में किए गए आयोजन में व्यय की गई राशि की वर्षवार जानकारी प्रदान करें। वर्ष 2014 से वर्तमान तक कितने किसान हितग्राही लाभान्वित हुए हैं। (ग) प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना अन्तर्गत वर्ष 2014 से वर्तमान तक एक्सटेंशन गतिविधियां आयोजित करने हेतु सिवनी जिले में कितनी वित्तीय सहायता प्रशिक्षण हेतु प्राप्त हुई है? इस राशि से सिवनी जिले में भ्रमण क्षमता विकास प्रशिक्षण नवाचार, कार्यशाला आदि गतिविधियों का संचालन किया गया है, यदि हाँ, तो इन गतिविधियों में शामिल होने वाले किसानों की संख्या व गतिविधि संचालन में व्यय की गई राशि की जानकारी कार्यक्रमवार पृथक-पृथक देवें?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ग) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है।
अलीराजपुर जिले अंतर्गत साकडी से वखतगढ़ रोड निर्माण
[लोक निर्माण]
44. ( क्र. 5114 ) श्री नागर सिंह चौहान : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या माननीय मुख्यमंत्री द्वारा आलीराजपुर जिले के सोण्डवा प्रवास के समय साकडी से वखतगढ़ सड़क निर्माण की घोषणा की गई थी? यदी हाँ तो उक्त घोषणा की तिथि बतायें। (ख) उक्त घोषणा के पालन में कब कब क्या कार्यवाही की गई, तिथिवार बतायें। (ग) उक्त घोषणा अनुसार कार्यवाही की गई तो साकडी से वखतगढ़ सड़क निर्माण कार्य कब तक प्रारंभ हो जावेगा?
लोक
निर्माण
मंत्री ( श्री
रामपाल सिंह ) : (क)
जी हाँ। दिनांक
13.08.2015
को। (ख) जानकारी
संलग्न परिशिष्ट
अनुसार है। (ग)
वर्तमान में
कार्य
प्रारंभ करने
की समय अवधि बताना
संभव नहीं है।
परिशिष्ट
- ''सोलह''
भ्रष्टाचार में लिप्त अधिकारी पर कार्यवाही
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
45. ( क्र. 5215 ) श्री निशंक कुमार जैन : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बैतूल जिले के कृषि विभाग के भ्रष्टाचारों के संबंध में सुनील पटेरिया की दिनांक 12/01/2008 को की गई शिकायत पर कार्यालय मुख्यमंत्री निवास म.प्र. के नोटशीट क्रमांक/11421/अ.स.मु./2008 दिनांक 01/02/2008 से चर्चा उपरांत कार्यवाही करने के निर्देश विभाग को दिये गये थे? यदि हाँ, तो प्रश्न दिनांक तक की गई कार्यवाही की प्रति सहित बतावें और यदि नहीं, तो क्यों? जाँच लंबित रहने के लिए जिम्मेदार अधिकारियों पर विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई? (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में क्या संचालक कृषि भोपाल के पत्र क्रमांक 356 दिनांक 07/10/2008 के संदर्भ में संयुक्त संचालक कृषि होशंगाबाद का पत्र क्रमांक 2266 दिनांक 12/02/2015 में दिनांक 18/08/2011 को गठित जाँच दल से एक माह में जाँच प्रतिवेदन चाहा था? यदि हाँ, तो प्रतिवेदन की प्रति सहित बतावें यदि नहीं, तो जाँच प्रतिवेदन लंबित रहने के लिए कौन-कौन अधिकारी दोषी है? क्या शासन दोषी अधिकारियों पर प्रश्न दिनांक तक की गई कार्यवाही से अवगत कराएगा? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) क्या विदिशा कार्यकाल में उप संचालक कृषि द्वारा विधानसभा प्रश्न क्रमांक 2286 दिनांक 20/07/2011 के संबंध में पत्र क्रमांक 5522-23 दिनांक 07/07/2011 से संचालनालय भोपाल को जानकारी देने के बाद एम.पी.एग्रो विदिशा के विरूद्ध कीटनाशक का अवैध व्यापार पर दण्डात्मक कार्यवाही करने के स्थान पर दिनांक 14/07/2011 को नया कीटनाशक का लायसेन्स जारी किया गया? यदि हाँ, तो इस अनियमितता के विरूद्ध शासन द्वारा प्रश्न दिनांक तक संबंधित उप संचालकों एवं एम.पी.एग्रो. मैनेजर के विरूद्ध क्या कार्यवाही की गई और यदि नहीं, तो क्यों?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) श्री सुनील पटेरिया द्वारा की गई कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई, अपितु श्री सुनील पटेरिया की दिनांक 12.1.2008 को की गई शिकायत प्राप्त हुई। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश ''क'' के संबंध में संचालक कृषि भोपाल के पत्र क्रमांक 356 दिनांक 7.10.2008 के संदर्भ में नहीं अपितु संचालनालय के पत्र क्रमांक अ-5/सी-3/7-01/1356 दिनांक 7.10.2008 द्वारा संयुक्त संचालक, किसान कल्याण तथा कृषि विकास भोपाल संभाग भोपाल को जाँच सौंपी गई थी जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
पथरिया किन्द्रहो-जेरठ मार्ग का निर्माण
[लोक निर्माण]
46. ( क्र. 5322 ) श्री लखन पटेल : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधान सभा पथरिया में पथरिया-किन्द्रहो-जेरठ मार्ग का निर्माण कराया गया है? यदि हाँ, तो निर्माण एजेन्सी व लागत क्या थी? (ख) मार्ग पर Crust design में CRMB की Thick एस्टिमेट में कितनी करना तय थी। क्या CRBM की THICK एस्टिमेट के अनुसार ली गई है? क्या सही है कि CRBM की THICK कार्यस्थल पर कम पाई गई व कई कि.मी. में CRMB की लेयर ही नहीं है। यदि हाँ, तो किन कारणों से कम पाई गई या Thickness की कमी की गयी। (ग) क्या पथरिया किन्द्रहो-जेरठ मार्ग के कई रनिग बिलों में विभाग के सब- इंजीनियर, एस.डी.ओ. के बिना हस्ताक्षर के भुगतान किये गये क्या इस प्रकार भुगतान करने का कोई नियम है तो बतावें। (घ) क्या पथरिया-किन्द्रहो-जेरठ मार्ग का कार्य अपूर्ण होने की स्थिति पर भी फाईनल दिखाया गया व एस.ई. द्वारा पेनाल्टी डिसाईड कर भुगतान कर दिया गया तो क्या ऐसे भुगतान करने का कोई नियम है? (ड.) क्या एस्टिमेट में निर्धारित कास्ट के हिसाव से कार्य स्थल के प्रत्येक किमी की Thickness की जाँच कराई जावेगी एवं प्रश्नांश (क) (ख) (ग) (घ) के परिप्रेक्ष्य में की गई अनियमितताओं के आधार पर क्या जवाबदार अधिकारियों व निर्माण एजेन्सी पर कोई कार्यवाही की जावेगी तो कब तक और क्या कार्यवाही की जावेगी।
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। मेसर्स अर्जित कंस्ट्रक्शन जबलपुर निर्माण एजेन्सी एवं राशि रू. 2193.86 लाख लागत थी। (ख) मार्ग के एस्टीमेट में क्रस्ट 230 एमएम (5.5 मीटर चौड़ाई में) एवं शोल्डर में 100 एमएम थी। जी हाँ। जी नहीं केवल 4400 मीटर लं. शोल्डर में नहीं पाई गई। ठेकेदार द्वारा कार्य मानक अनुसार न करने के कारण। (ग) जी हाँ, तृतीय, चतुर्थ एवं पाँचवे चल देयकों में बिना उपयंत्री एवं अनुविभागीय अधिकारी के हस्ताक्षर के भुगतान हुये है, जी नहीं। (घ) जी नहीं, कार्य पूर्ण होन के उपरांत। जी हाँ। (ड.) जाँच उपरांत निर्माण एजेन्सी पर कार्यवाही की गई एवं राशि रू. 1704561/- का भुगतान ठेकेदार को नहीं किया गया है। विस्तृत जाँच के निर्देश जारी किये गए है।
प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना क्रियान्वयन संबंधी
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
47. ( क्र. 5379 ) श्री बाला बच्चन : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) इंदौर संभाग में प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना लागू होने के बाद कितने कृषकों का फसल बीमा किया है? कितनी प्रीमियम राशि किसानों द्वारा जमा की गई है? जिलेवार रबी एवं खरीफ के संदर्भ में पृथक-पृथक बतावें। (ख) कृषक अंश, राज्य अंश, केन्द्र अंश, के रूप कितनी प्रीमियम राशि किस-किस कंपनी को दी गई? रबी एवं खरीफ के संदर्भ में पृथक-पृथक देवें। इस योजना के प्रारंभ होने के पूर्व के 2 वर्षों की जानकारी प्रश्नांश (क) व (ख) अनुसार देवें। (ग) खरीफ मौसम में प्राकृतिक आपदा से हुई क्षति के फलस्वरूप कितनी बीमा राशि कितने कृषकों को दी गई? जिलेवार बतावें। 1 से 500 रू.500 से 1000 रू. की बीमा राशि कितने कृषकों को दी गई? जिलावार बतावें। (घ) रबी फसल की जानकारी भी प्रश्नांश (ग) अनुसार देवें। क्या कारण है प्रीमियम की तुलना में बीमा राशि कम दी गई या निर्धारित नियमानुसार नहीं दी गई? इस पर निगरानी के लिए नियुक्त दोषी अधिकारियों एवं बीमा कंपनियों पर शासन कब तक कार्यवाही करेगा?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) प्रधानमंत्री फसल बीमा योजनांतर्गत कृषक अंश की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। अनुसार एग्रीकल्चर इन्श्योरेंस कम्पनी ऑफ इंण्डिया लिमिटेड भोपाल को दी गई। राज्यांश एवं केन्द्रांश का भुगतान प्रक्रियाधीन है। इस योजना के प्रारम्भ होने के पूर्व राष्ट्रीय कृषि बीमा योजना लागू थी जिसकी क्रियान्वयन एजेन्सी एग्रीकल्चर इन्श्योरेंस कम्पनी ऑफ इंण्डिया लिमिटेड भोपाल थी। योजनांतर्गत कृषकों से प्राप्त प्रीमियम शामिल कर दावो का भुगतान बीमा कम्पनी द्वारा किया जाता है शेष दावो का भुगतान राज्य एवं केन्द्र सरकार द्वारा बराबर अनुपात में वहन किया जाता है। जिसकी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ग) खरीफ 2016 मौसम हेतु दावों की गणना प्रक्रियाधीन है। (घ) रबी 2016-17 मौसम हेतु दावों की गणना प्रक्रियाधीन है।
बैंक शाखाओं में नगदी के परिवहन के लिए वाहन का क्रय
[सहकारिता]
48. ( क्र. 5433 ) श्रीमती ऊषा चौधरी : क्या राज्यमंत्री, सहकारिता महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मर्यादित विदिशा के संचालक मंडल ने जनवरी 2015 की बैठक में बैंक शाखाओं में नगदी के परिवहन के लिए वाहन (कैश व्हीकल) क्रय करने का प्रस्ताव पारित कर बैंक के अध्यक्ष को उक्त वाहन क्रय करने के लिए अधिकृत किया गया था? (ख) प्रश्नांश (क) का उत्तर यदि हाँ, तो क्या उक्त प्रस्ताव के क्रियान्यवयन में कैश व्हीकल न खरीदते हुए इनोवा का टाप एण्ड मॉडल क्रय कर लिया गया है? (ग) प्रश्नांश (ख) का उत्तर यदि हाँ, तो क्या उक्त वाहन का उपयोग नगदी परिवहन के लिए न हो कर बैंक के अध्यक्ष स्वयं के उपयोग में ले रहे हैं? (घ) यदि हाँ, तो क्या यह सार्वजनिक धन/संपत्ति के दुरूपयोग का मामला है? यदि हाँ, तो अभी तक क्या कार्यवाही की गई है? यदि नहीं, तो क्यों? कब तक कार्यवाही की जावेगी?
राज्यमंत्री, सहकारिता ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक मर्या., विदिशा के संचालक मंडल की बैठक दिनांक 21.01.2015 को विषय क्रमांक 12 में बैंक की ऋण वसूली, शाखा एवं संस्थाओं के पर्यवेक्षण हेतु व शाखाओं की सिलक व्यवस्था के लिए एक नवीन वाहन बैंक की पात्रता अनुसार वाहन निधि में प्रावधानित राशि के अंतर्गत क्रय करने का निर्णय लिया जाकर बैंक अध्यक्ष एवं मुख्य कार्यपालन अधिकारी को स्टैण्डर्ड कम्पनी का वाहन क्रय करने के लिए अधिकृत किया गया था। (ख) उत्तरांश ''क'' अनुसार पारित निर्णय के आधार पर बैंक द्वारा इनोवा कम्पनी का वाहन क्रय किया गया है। (ग) बैंक के विस्तृत कार्यक्षेत्र का निरीक्षण, सतत् सम्पर्क हेतु तथा समय-समय पर विभिन्न बैंकिंग क्षेत्र में आयोजित आवश्यक बैठक, ऋण वसूली की समीक्षा करने हेतु बैंक अध्यक्ष द्वारा वाहन का उपयोग किया जाता है। (घ) उत्तरांश ''क'', ''ख'' एवं ''ग'' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय कार्यालयों के हो रहे जर्जर भवन
[लोक निर्माण]
49. ( क्र. 5472 ) डॉ. कैलाश जाटव : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता द्वारा गोटेगांव में समस्त विभागों के विभागीय कार्यालय एक ही स्थान में बनाये जाने हेतु स्वामी विवेकानन्द विभागीय परिसर निर्माण हेतु पत्राचार किया था? उस पत्र पर क्या कार्यवाही की गई?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : जी हाँ, डी.पी.आर. दिनांक 03.12.2016 को कलेक्टर नरसिंगपुर को प्रेषित। स्वीकृति अपेक्षित।
विधानसभा क्षेत्र ब्यावरा अंतर्गत महत्वपूर्ण मार्गों की स्वीकृति
[लोक निर्माण]
50. ( क्र. 5523 ) श्री नारायण सिंह पँवार : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के अता. प्रश्न संख्या 98, (क्रमांक 7471) दिनांक 29 मार्च 2016 के उत्तर में बताया गया था कि विधानसभा क्षेत्र ब्यावरा के अंतर्गत ग्राम कानेड़ से तेलीगांव एवं कानरखेड़ी से पार्वती ब्रिज सड़क मार्ग से वंचित है तो प्रश्न दिनांक तक उक्त मार्गों को सड़क मार्ग से जोड़ने हेतु क्या कार्यवाही की गई? (ख) क्या प्रश्नकर्ता द्वारा दिनांक 31 जनवरी 2017 ब्यावरा नगर में एन.एच.ए.आई. के फोरलेन भूमिपूजन कार्यक्रम एवं जिला स्तरीय अंत्योदय मेले में माननीय मुख्यमंत्री जी एवं माननीय विभागीय मंत्री जी को पत्र सौंपकर ग्राम कानरखेड़ी से पार्वती ब्रिज 3 कि.मी., ग्राम कडियाहाट से सलेहपुर 3 कि.मी., ग्राम शमशेरपुरा से गांगाहोनी 4 कि.मी., ग्राम भगवतीपुर से मलावर 5 कि.मी. सड़क निर्माण कार्य की मांग की गई? यदि हाँ, तो प्रश्न दिनांक तक उक्त मार्गों की स्वीकृति हेतु क्या कार्यवाही की गई? (ग) क्या उपरोक्त मार्गों के निर्माण कराये जाने से ग्रामीणजनों को अत्याधिक दूरी वाले मार्गों से आवागमन न कर अत्यंत सुगम आवागमन प्राप्त हो सकेगा? यदि हाँ, तो क्या शासन उक्त मार्गों की स्वीकृति प्रदान करेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ। सक्षम समिति के अनुमोदन पश्चात बजट में सम्मिलित करने की कार्यवाही की जावेगी। (ख) माननीय मुख्यमंत्री जी एवं माननीय लोक निर्माण विभाग मंत्री कार्यालय से निर्देश प्राप्त नहीं हुये है। शेष प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है। (ग) जी हाँ। सक्षम समिति के अनुमोदन पश्चात बजट में सम्मिलित करने की प्रक्रिया की जावेगी। वर्तमान में समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजनांतर्गत सम्मिलित प्रस्तावों की स्वीकृति
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
51. ( क्र. 5524 ) श्री नारायण सिंह पँवार : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजनांतर्गत विभाग द्वारा अभियान चलाकर नवीन स्टॉप डेम निर्माण, नवीन तालाब निर्माण, तालाब/स्टॉप डेम मरम्मत आदि कार्यों हेतु ग्रामों में स्थल को चिन्हित कर उचित माध्यम से प्रस्ताव प्राप्त किये गये थे? यदि हाँ, तो उक्त प्रस्तावों में ब्यावरा विधानसभा क्षेत्र के कौन-कौन से कार्य सम्मिलित किये गये हैं? (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में उक्त प्रस्तावों की स्वीकृति हेतु अद्यतन स्थिति क्या है? कब तक उक्त प्रस्तावों में स्वीकृति एवं उक्त कार्ययोजना धरातल पर आकार ले सकेगी?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्राप्त प्रस्तावों को जिले की डी.आई.पी. में सम्मिलित कर दिनांक 22.12.2016 को राज्य स्तरीय मंजूरी समिति की बैठक में अनुमोदन प्राप्त हो चुका है। सम्मिलित कार्यों का क्रियान्वयन डी.आई.पी. में उल्लेखित अवधि अनुसार संबंधित विभागों द्वारा किये जावेंगे।
धार जिले में किसानों की फसलों की अनुदान राशि का भुगतान
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
52. ( क्र. 5661 ) श्री उमंग सिंघार : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या पत्र क्र./बी-8-6/2015/14-2 दिनांक 10/06/2016 में शासन द्वारा एन.एफ.एस.एम., एन.एम.ओ.ओ.पी., आत्मा योजनाओं में डी.बी.टी. स्कीम लागू की गयी है। जिकसे बिन्दु 8.2 में चयनित किसानों के खातों में 50 प्रतिशत राशि एडवांस जमा किया जाना प्रावधानित है? यदि हाँ, तो क्या धार जिले में किसानों के खातों में एडवांस राशि जमा की गई? फसल प्रदर्शनी में बीज के अलावा अन्य आदान सामग्री किसानों को लाइसेंस धारक विक्रेताओं से क्रय करके बिल प्रस्तुत करने पर सीधे किसानों के बैंक खातों में अनुदान दिया जायेगा? क्या वर्ष खरीफ 2016 एवं रबी 2016-17 में किसानों के यहाँ डाले गये फसल प्रदर्शनों में किसानों के खातों में अनुदान राशि का भुगतान धार जिले में कर दिया गया है? यदि नहीं, तो कब तक कर दिया जावेगा? विलंब के लिए कौन-कौन अधिकारी दोषी है? (ख) क्या 50 प्रतिशत अनुदान पर किसानों को योजनाओं में बांटी जानी वाले सामग्री के नमूने लेकर परीक्षण कराया गया? यदि हाँ, तो धार जिले में लिये गये नमूनों की संख्या एवं अमानकों पर की गयी कार्यवाही से अवगत कराते हुये बतावें? (ग) विधान सभा परि.अता. प्र.सं. 6 (क्र. 102) 10 दिसंबर 2014 में अमानक उर्वरक पर 24 एवं अमानक बीज पर 12 एफ.आई.आर. बेचने वाले संस्थाओं पर किये जाने की जानकारी दी थी। यदि हाँ, तो प्रश्न दिनांक तक इन पर की गई कार्यवाही से अवगत करावें? यदि नहीं, तो कार्यवाही में विलंब के लिए कौन-कौन अधिकारी दोषी है, नाम एवं पद सहित बताएं?
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जी हाँ। धार जिले में किसानों के खातों में एडवांस राशि जमा नहीं की गयी है। फसल प्रदर्शन में बीज के अलावा अन्य आदान सामग्री पर किसान द्वारा लाइसेंस धारी विक्रेताओं से सीधे सामग्री क्रय कर बिल प्रस्तुत करने पर अनुदान उनके बैंक खातों में जमा किया जावेगा। धार जिले में आत्मा योजना अंतर्गत डाले गये फसल प्रदर्शनों में किसानों द्वारा बीज के अलावा अन्य आदान सामग्री क्रय कर बिल प्रस्तुत किये जाने से राशि उनके खातों में भुगतान की गई। रा.खा.सु.मि. एवं एन.एम.ओ.ओ.पी. में डाले गये प्रदर्शनों में किसानों द्वारा बीज के अलावा अन्य आदान सामग्री क्रय कर बिल प्रस्तुत करने पर उनके खातों में राशि का शीघ्र भुगतान किया जावेगा। (ख) जी हाँ। धार जिले में बीज के 5 एवं उर्वरक के 2 कुल 7 नमूने लिये गये। अमानक नमूनों पर की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ग) जी हाँ। दिसम्बर 2014 में अमानक उर्वरक पर 24 एफ.आय.आर. बेचने वाली संस्थाओं पर जिलों द्वारा की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है तथा अमानक बीज पर 12 एफ.आय.आर. बेचने वाली संस्थाओं पर जिलों द्वारा की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है। नियमानुसार कार्यवाही होने से शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता है।
फसल बीमा प्रीमियम की राशि की वसूली
[किसान कल्याण तथा कृषि विकास]
53. ( क्र. 5692 ) श्री दिलीप सिंह परिहार : क्या किसान कल्याण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रबी 2016 अंतर्गत उज्जैन संभाग में कितने हेक्टेयर क्षेत्र में गेहूं, चना एवं सरसों फसल की बोवनी की गई है? जिलेवार ब्यौरा दें। (ख) क्या प्रश्नांश (क) में दर्शाई गयी अवधि में प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना अंतर्गत निर्धारित फसलवार ऋणमान (Scale of finance) अनुसार ही ऋणी एवं अऋणी किसानों से फसल बीमा प्रीमियम की राशि वसूल की जा रही है? यदि हाँ, तो किसानों से अब तक कितने हेक्टेयर क्षेत्र के लिये कितनी राशि बीमा प्रीमियम के रूप में वसूल की गई है। बीमा प्रीमियम का फसलवार, क्षेत्रफलवार ब्यौरा दें। (ग) नीमच जिले में किसानों से फसल बीमा प्रीमियम की राशि निर्धारित फसलवार ऋणमान (Scale of finance) अनुसार वसूल नहीं करने बाबत् कोई शिकायत जिला प्रशासन को प्राप्त हुई है? (घ) यदि हाँ, तो प्राप्त शिकायत के परिप्रेक्ष्य में अब तक क्या कार्यवाही की गयी।
किसान कल्याण मंत्री ( श्री गौरीशंकर बिसेन ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) प्रधानमंत्री फसल बीमा योजनांतर्गत जिले में निर्धारित फसल ऋणमान के अनुसार ही सभी कृषकों से फसल बीमा प्रीमियम राशि ली जा रही है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ग) जी हाँ। (घ) नीमच जिले में किसानों से फसल बीमा प्रीमियम की राशि निर्धारित फसलवार, ऋणमान अनुसार वसूल नहीं करने बाबत शिकायत जिला प्रशासन को प्राप्त हुई है जो कि जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक से संबंधित होने से कलेक्टर द्वारा मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक को निराकरण हेतु प्रेषित की गई उनके द्वारा शिकायत के संबंध में प्रस्तुत जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है।
गांधीसागर जलाशय से सिंचाई से वंचित ग्रामों के लिए योजना
[जल संसाधन]
54. ( क्र. 5709 ) श्री चन्दरसिंह सिसौदिया : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) गांधीसागर बांध से लगे हुए कुल कितने ग्राम हैं जो सिंचाई से वंचित हैं इन ग्रामों की सिंचाई के लिए विभाग ने कोई योजना बनाई है? किन किन ग्रामों को जोड़ा जा रहा है (ख) कुल कितने ग्राम हैं जो गांधीसागर जलाशय से लगे हुए हैं परतु इन ग्रामों को सिंचाई सुविधा का लाभ नहीं मिल पा रहा है? (ग) क्या शासन ऐसे वंचित ग्रामों के लिए कोई योजना बनाकर इन ग्रामों को सिंचाई हेतु जोड़ेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) एवं (ख) गांधी सागर जलाशय से लगे 118 ग्राम हैं जो सिंचाई से वंचित हैं। वर्तमान में गरोठ सूक्ष्म सिंचाई परियोजना निर्माणधीन है तथा शामगढ़-सुवासरा परियोजना विचाराधीन है। इन दोनों परियोजनाओं से उपरोक्त 118 ग्रामों में कुल 48 ग्राम लाभांवित होंगे। लाभांवित ग्रामों की सूची संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) शेष 70 ग्रामों के लिए अभी कोई कार्य योजना नहीं है। समय-सीमा बताना संभव नहीं है।
नवीन सड़कों का निर्माण
[लोक निर्माण]
55. ( क्र. 5723 ) श्री मेहरबान सिंह रावत : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सबलगढ़ विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत कितने ग्रामों को लोक निर्माण विभाग द्वारा पक्की सड़क से नहीं जोड़ा गया है? ग्रामवार जानकारी बतावें? विगत दो वर्षों में इन ग्रामों को पक्की सड़क से जोड़ने हेतु विभाग द्वारा शासन को कब प्रस्ताव भेजे गए? यदि नहीं, तो विभाग इन सड़कों को जोड़ने हेतु कब तक प्रस्ताव भेजेगा? (ख) सबलगढ़ विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत लोक निर्माण विभाग द्वारा कितनी सड़कों का निर्माण कराया जा रहा है? ग्रामवार जानकारी बतावें। कितनी सड़कें ऐसी हैं जिनका कार्य अधूरा है? ग्रामवार जानकारी बतावें। कार्य कब तक पूर्ण कर दिया जावेगा? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार विभाग द्वारा भेजे गए नवीन सड़कों को कब तक मंजूर कर दिया जावेगा एवं कब तक कार्य पूर्ण करा दिया जाएगा?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) 54 ग्रामों। ग्रामवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार एवं भेजे गये प्रस्ताव की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'स' एवं 'द' अनुसार है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है।
अनुपयोगी मार्ग निर्माण
[लोक निर्माण]
56. ( क्र. 5736 ) श्री रामलाल रौतेल : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला अनूपपुर अन्तर्गत दुलहा तालाब से जैतहरी मुख्य पहुंच मार्ग लम्बाई 5 कि.मी. की प्रशासकीय स्वीकृत दिनांक 01/04/2003 को राशि रूपये 246.77 लाख हुई थी तथा उक्त कार्यादेश क्रमांक 3372-73/25913 अनुबंध अनुसार कार्यपूर्ण करने की तिथि 24/04/2014 थी? उक्त मार्ग किस कार्यपालन यंत्री तथा संविदाकार के द्वारा किया गया है? (ख) उक्त मार्ग निर्माण में कुल कितनी राशि खर्च की जा चुकी है? क्या इतनी राशि व्यय के बाद भी सड़क की उपयोगिता नहीं हैं? (ग) क्या अनूपपुर के भूमाफिया को उपकृत करने का प्रयास किया गया है? यदि हाँ, तो उक्त मार्ग का भौतिक सत्यापन उच्च अधिकारियों से कराया जायेगा?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी हाँ, दिनांक 01.04.2003 को नहीं, अपितु 01.04.2013 को। कार्य पूर्ण करने की तिथि 24.07.2014 थी। श्री बी.के. विश्वकर्मा कार्यपालन यंत्री एवं मेसर्स पी.के. त्रिपाठी संविदाकार द्वारा कार्य किया गया है। (ख) रूपये 184.97 लाख। 4.20 कि.मी. मार्ग का उपयोग किया जा रहा है शेष शुरूआत के 128 मी. में एवं मध्य छोर के 625 मीटर कुल 753 मीटर में निजी भूमि है जिसे प्राप्त करने के लिये कलेक्टर एवं अनुविभागीय अधिकारी राजस्व अनूपपुर को पत्राचार किया गया किन्तु भू-स्वामियों द्वारा भूमि देने से इंकार किया जा रहा है। (ग) जी नहीं। प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पहुँच मार्ग निर्माण
[लोक निर्माण]
57. ( क्र. 5751 ) श्री निशंक कुमार जैन : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या लोक निर्माण विभाग के पास पहुँच मार्ग निर्माण कराने की योजना है? (ख) प्रश्नांश (क) का उत्तर यदि हाँ, है तो प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत आने वाले शासकीय हाई स्कूल/हायरसेकण्ड्री स्कूल नौघई, सतापाडाकला, सिहोद, दैयरपुर, सुमेरदांगी, त्योंदा, गुन्नोठा, बरखेडागंभीर व अन्य के शाला भवनों का निर्माण ग्राम की बस्ती से लगभग 1-2 किलो मीटर दूरी पर परियोजना क्रियान्वयन इकाई लोक निर्माण विभाग संभाग विदिशा द्वारा कराया गया है? (ग) क्या प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित शालाओं में पहुँच मार्ग न होने से छात्रों को बारिश के समय आवागमन में असुविधा होती है? (घ) प्रश्नांश (ग) का उत्तर यदि सही है तो विगत वर्षों में जिला योजना समिति की बैठक में प्रभारी मंत्री द्वारा उक्त शालाओं में पहुँच मार्ग निर्माण कराने का आश्वासन दिया था? यदि हाँ, तो उक्त शालाओं में विभाग द्वारा कार्य योजना तैयार कर पहुँच मार्ग का निर्माण करवाया जाएगा? यदि हाँ, तो कब तक?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी नहीं। (ख) से (ग) जी हाँ। (घ) जी हाँ जिला योजना समिति की बैठक दिनांक 23.09.15 में प्रभारी मंत्रीजी के निर्देश अनुसार पहुंच मार्ग निर्माण हेतु प्राक्कलन दिनांक 16.11.15 द्वारा मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत विदिशा को प्रेषित किये गये है। स्वीकृति अपेक्षित। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
रायसेन जिले में दो लाख रूपये से ज्यादा के कार्य
[जल संसाधन]
58. ( क्र. 5791 ) श्री रामकिशन पटेल : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रायसेन जिले में दिनांक 1.4.2013 से प्रश्न तिथि तक 2 लाख रूपये से ज्यादा राशि वाले क्या-क्या कार्य किये गये? (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित जिले में उक्त समयानुसार मेन्टेनेंस पर कितनी राशि व्यय की गयी? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) में उल्लेखित कार्यों में कितनी राशि का भुगतान किया गया? (घ) प्रश्नांश (क) एवं (ख) में उल्लेखित स्थानों एवं समयानुसार उक्त सभी कार्यों का गुणवत्ता एवं उपयोगिता प्रमाण पत्रों को किस-किस नाम/पदनाम द्वारा जारी किया गया?
जल संसाधन मंत्री ( डॉ. नरोत्तम मिश्र ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नाधीन अवधि में मेंटेनेंस पर रू.518.81 लाख व्यय किया जाना प्रतिवेदित है। (ग) प्रश्नांश ''क'' एवं ''ख'' में उल्लेखित कार्यों पर रू.26,170.93 लाख व्यय की जाना प्रतिवेदित है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
पंधाना से निहालवाडी के टाउन पोर्सन के सीमेंट कांक्रीट के कार्य
[लोक निर्माण]
59. ( क्र. 5792 ) श्रीमती योगिता नवलसिंग बोरकर : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत पंधाना से निहालवाडी के टाउन पोर्सन के सीमेंट कांक्रीट 1.23 कि.मी. का कार्य हो चुका है या नहीं? (ख) यदि हाँ, तो क्या विभाग इसे भौतिक रूप से सत्यापित करा सकता हैं? (ग) यदि नहीं, तो यह कब तक होगा? (घ) विगत 5 वर्षों से क्यों पुराना डामर रोड ही दुरुस्त हो जाता है?
लोक निर्माण मंत्री ( श्री रामपाल सिंह ) : (क) जी नहीं। (ख) प्रश्नांश 'क' अनुसार प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (ग) विस्तृत जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। (घ) जी हाँ। भूतल परिवहन मंत्रालय भारत सरकार के मापदण्ड, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है।
अधिग्रहित भूमि का किसानों को मुआवजा
[लोक निर्माण]
60. ( क्र. 5824 ) डॉ. गोविन्द सिंह : क्या लोक निर्माण मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भिण्ड जिले अंतर्गत जखमौली-राठौरन की मढ़ैया मार्ग तथा सिंध नदी पर पुल कितनी लागत का एवं कब स्वीकृत किया गया? इस मार्ग के निर्माण हेतु शासन से प्रशासकीय स्वीकृति कब एवं कितनी राशि की प्राप्त हुई थी? (ख) उक्त मार्ग का निर्माण कार्य पूर्ण करने की समयावधि अनुबंधानुसार क्या थी एवं वर्तमान में कितना कार्य किया जा चुका है एवं कितना कार्य किन-किन कारणों से शेष है? (ग) क्या उक्त मार्ग हेतु जिन किसानों की कृषि भूमि अधिग्रहित की गई है उन किसानों को मुआवजा अभी तक नहीं दिया गया है? यदि हाँ, तो अभी तक मुआवजा वितरण नहीं किए जाने के क्या कारण हैं? कब तक मुआवजा का वितरण किया जाएगा? (घ) दबोह-जगदीशपुरा-संसीगढ़-आलमपुर मार्ग कितनी लागत से कितनी लंबाई का स्वीकृत किया गया? (ड.) उक्त प्रश्नांश के परिप्रेक्ष्य में क्या माननीय मंत्री लोक निर्माण विभाग द्वारा टीप क्र. 11/स्था./मंत्री, लो.नि.वि./2016 भोपा