मध्यप्रदेश विधान सभा
प्रश्नोत्तर-सूची
मार्च, 2025 सत्र
सोमवार, दिनांक 24 मार्च, 2025
भाग-1
तारांकित
प्रश्नोत्तर
शिवपुरी-श्योपुर
हाईवे किनारे
शबरी आश्रम
निर्माण
[संस्कृति]
1. ( *क्र. 1442 ) श्री मुकेश मल्होत्रा : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या तत्कालीन मुख्यमंत्री महोदय श्री शिवराज सिंह चौहान ने दिनांक 25 नवम्बर, 2017 को शिवपुरी जिले के ग्राम सेसई में जिला श्योपुर के आदिवासी विकास खण्ड कराहल, ग्वालियर के घाटीगांव और अशोक नगर के करीला धाम के पास और कराहल, शिवपुरी गुना में और आदिवासी विकास खण्ड कराहल में 7.50-7.50 करोड़ की लागत से माता शबरी आश्रमों के निर्माण की घोषणा की थी? (ख) प्रश्नांश (क) का उत्तर यदि हाँ, तो क्या आज दिनांक तक उक्त स्थानों में आश्रम निर्माण हेतु भूमि आवंटन, प्रशासकीय स्वीकृति, धनराशि आवंटन कर दिया गया है? यदि हाँ, तो दस्तावेज सहित जानकारी प्रदाय करें। यदि कार्य आरंभ नहीं हुआ है तो क्यों तथा विलंब का कारण बतावें तथा विलंब के दोषियों पर क्या कार्यवाही की जावेगी? (ग) क्या विभाग कराहल व अन्य प्रस्तावित स्थानों पर माता शबरी आश्रमों का निर्माण कार्य शीघ्र आरंभ करेगा? यदि हाँ, तो समय-सीमा बतावें। यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। (ख) उक्त कार्य हेतु भूमि आवंटन की कार्यवाही प्रचलन में है। (ग) उत्तरांश 'ख' अनुसार।
प्रदेश में नवजात शिशु, शिशु बाल मृत्यु दर
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
2. ( *क्र. 2830 ) श्री प्रताप ग्रेवाल : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश की लोक स्वास्थ्य अधोसंरचना एवं स्वास्थ्य सेवा पर कैग 2024 का प्रतिवेदन संख्या 6 में उल्लेखित टिप्पणियों से शासन क्या यह मानता है कि क्या प्रदेश की स्वास्थ्य अधोसंरचना एवं सेवा संतोषजनक है? यदि हाँ, तो ऐसे मानने के आधार बिन्दु क्या है? (ख) क्या कैग ने प्रतिवेदन में 8 विषयों पर तथ्य परक निरीक्षण में यह पाया कि स्वास्थ्य अधोसंरचना एवं सेवा निम्न गुणवत्ता की है तथा इस कारण प्रदेश नवजात शिशु, शिशु बाल मृत्यु दर में देश में प्रथम तथा गर्भवती महिला मृत्यु दर में देश में तीसरे स्थान पर है? (ग) कैग ने प्रतिवेदन में 9 अध्याय में 2016 बिन्दुओं पर प्रदेश की स्वास्थ्य अधोसंरचना एवं सेवा में गंभीर कमियां पाई हैं, इन्हें दूर करने के लिये कैग प्रतिवेदन के बाद क्या-क्या प्रयास किये गये? विस्तृत जानकारी दें। (घ) विभिन्न केटेगरी के चिकित्सालयों में जनवरी 2025 में शासकीय सार्वजनिक स्वास्थ्य मानक आई.पी.एच.एस. अनुसार राज्य शासन द्वारा स्वीकृत, कार्यरत आई.पी.एच.एस. से कम संख्या और उनका प्रतिशत स्वीकृत पद से कम संख्या और उनका प्रतिशत, की सूची विशेषज्ञ, चिकित्सक, नर्सिंग स्टाफ तथा पैरामेडिकल स्टाफ अनुसार बतावें। (ड.) कैग के प्रतिवेदन के पैरा 4.8.5 में उल्लेखित 192 मामले की विस्तृत सूची आपूर्तिकर्ता के नाम, दवा का नाम, डी.डी.ओ. का नाम, दिनांक तथा स्थानीय दर सहित देवें तथा बतावें कि अनु सेल्स, अन्य मेडिकल द्वारा वर्ष 2016-17 से 2024-25 तक आपूर्ति की गई दवा के नाम, दर, डी.डी.ओ. का नाम, दिनांक, कुल मात्रा, कुल राशि, भुगतान की राशि सहित देवें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) से (ड.) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
धार्मिक एवं पर्यटन केन्द्रों में मूलभूत सुविधाएं
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
3. ( *क्र. 2910 ) श्री बृज बिहारी पटैरिया : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सागर जिले में किस-किस विधानसभा क्षेत्र के किन-किन धार्मिक न्यासों मंदिरों आदि के जीर्णोद्धार, विकास कार्य, रिपेयरिंग, सौन्दर्यीकरण के लिये कितनी-कितनी राशि वित्तीय वर्ष 2024-25 में आवंटित की गई? (ख) देवरी विधानसभा के शिवमंदिर बरकौटी, नाहरमउ पहाड़ी में गढ़ मंदिर, कल्याण बाबा जैतपुर, बारहा के नरसिंहगढ़ भगवान मंदिर, शिव पार्वती मंदिर बिजौरा (धुलतरा), देवरी के फूटा मंदिर, सिद्धबाबा गढ़ी पिपरिया के मंदिरों को चालू वित्तीय वर्ष में कितनी-कितनी राशि स्वीकृति की गई? मदवार विवरण देवें। यदि नहीं, तो क्या आगामी वित्तीय वर्ष में इनके विकास हेतु राशि का आवंटन किया जायेगा? (ग) विधानसभा क्षेत्र के जो मंदिर न्यास पर्यटक स्थल पंजीकृत/कलेक्टर की देखरेख में हैं, उनके विकास की क्या योजना है? विवरण देवें। यदि नहीं, तो क्या आगामी वित्तीय वर्ष 2025-26 में इनकी मरम्मत सौन्दर्यीकरण, पेयजल एवं अन्य विकास कार्य हेतु प्रावधान किया जा रहा है? सूची उपलब्ध करायें।
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) सागर जिले की किसी भी विधानसभा क्षेत्र के धार्मिक न्यासों मंदिरों आदि के जीर्णोद्धार, विकास कार्य, रिपेरिंग, सौन्दर्यकरण के लिये वित्तीय वर्ष 2024-25 में राशि आवंटित नहीं की गई है। (ख) देवरी विधानसभा क्षेत्र अन्तर्गत वर्णित मंदिरों के लिये चालू वित्तीय वर्ष 2024-25 में राशि स्वीकृत नहीं की गई है। शासन स्तर पर प्रस्ताव प्राप्त नहीं है। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता। (ग) देवरी विधानसभा क्षेत्र अन्तर्गत मंदिर न्यास, पर्यटक, स्थल/पंजीकृत के लिये विकास योजना प्राप्त नहीं है। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता।
जिला चिकित्सालय सीधी में स्वास्थ्य सुविधाओं के सुधार
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
4. ( *क्र. 2871 ) श्रीमती रीती पाठक : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला चिकित्सालय सीधी में विशेषज्ञों के 37 पद स्वीकृत हैं, जिसमें 12 पदों पर विशेषज्ञ कार्यरत हैं और 25 पद रिक्त हैं एवं चिकित्सा अधिकारियों के 26 पद स्वीकृत हैं, जिसमें से 20 पदों पर चिकित्सक कार्यरत हैं और 6 पद रिक्त हैं? इन रिक्त पदों पर नियुक्ति कब तक कर दी जायेगी? (ख) सीधी जिले एवं ऐसे अन्य जिलों में जहाँ चिकित्सक नियुक्ति के बाद भी कार्य करने में असहमति प्रकट करते हैं, वहाँ पर चिकित्सकों को भेजने हेतु वेतनमान में अतिरिक्त वृद्धि या विशेष पैकेज की व्यवस्था क्या सरकार द्वारा की जा सकती है? (ग) जिला चिकित्सालय सीधी में आए दिन लापरवाही व अव्यवस्था के कारण बड़ी दुर्घटनाएं होती हैं, जिससे जिले के आमजन मानस के बीच प्रमुखता से यह विषय दृष्टिगोचर होता है एवं समाचारों में ये खबरें अपनी जगह बनाती हैं, इन घटनाओं की रोकथाम के लिये सरकार द्वारा क्या कदम उठाए जा रहे हैं? (घ) सीधी में सरकार द्वारा चिकित्सा महाविद्यालय स्वीकृत किया गया है, जिसके संचालन हेतु इच्छुक संस्थाओं को आवंटन की निविदा आमंत्रित की गई थी, किन्तु कई बार समयवृद्धि के बाद भी कोई संस्था प्रक्रिया में सम्मिलित नहीं हुई, अतएव चिकित्सा महाविद्यालय स्थापना प्रक्रिया पूर्ववत लंबित है? क्या सरकार इसमें हस्तक्षेप करते हुए जल्द चिकित्सा महाविद्यालय की स्थापना हेतु कोई निर्णय लेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) पदपूर्ति एक निरंतर प्रक्रिया है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ख) जनजाति बाहुल्य विकास खण्डों में चिकित्सकों के पदस्थ होने पर उन्हें सुषेण भत्ता अतिरिक्त रूप से दिये जाने का प्रावधान है। (ग) शिकायत प्राप्त होने पर नियमानुसार कार्यवाही की जाती है। (घ) पी.पी.पी. आधार पर मेडिकल कॉलेज स्थापना हेतु जारी प्रथम चरण की निविदा में किसी भी निविदाकार द्वारा कोई बिड प्राप्त नहीं हुई है। पुनः निविदा आमंत्रण की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है।
खाद्यान्न में मिलावटखोरी रोकी जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
5. ( *क्र. 2311 ) डॉ. अभिलाष पाण्डेय : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विभाग द्वारा खाद्यान्न में मिलावट के विरुद्ध कोई विशेष अभियान चलाकर मिलावट करने वालों पर कार्रवाई की जा रही है? यदि हाँ, तो गत 6 माह में की गई जिलेवार कार्रवाई की जानकारी दें। (ख) वर्तमान में प्रदेश में फास्ट फूड का चलन अत्यंत तेजी से बढ़ा है, जिसके फलस्वरूप बीमारियां भी तेजी से बढ़ी हैं। क्या विभाग द्वारा फास्ट फूड बनाए जाने के संबंध में कोई गाईडलाइन जारी की गई है, जिनमें हानिकारक खाद्यान्न सामग्री जैसे अजीनोमोटो, फ्लेवर इंग्रीडिएंट्स, प्रिजर्वेटिव्स का मिश्रण अत्यंत कम किया जा सके? यदि हाँ, तो गाईडलाइन की जानकारी दें। यदि नहीं, तो क्या विभाग गाईडलाइन जारी कर समय-समय पर दुकानों पर जांच अभियान चला कर कार्रवाई करेगा? (ग) क्या गत 6 माह में प्रदेश में संचालित समस्त हॉकर्स कॉर्नर्स पर विभाग द्वारा कब-कब अभियान चलाकर वहां पर बनने वाली खाद्य सामग्री की गुणवत्ता जांच और रसोई में सफाई की जांच की गई? जिलेवार जानकारी दें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) FOOD SAFETY AND STANDARDS AUTHORITY OF INDIA (FSSAI), भारत सरकार द्वारा गाईडलाइन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब''अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है।
पिछोर को जिला बनाने की घोषणा
[राजस्व]
6. ( *क्र. 2469 ) श्री प्रीतम लोधी : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या दिनांक 21 अगस्त, 2023 को पिछोर में आयोजित मुख्यमंत्री लाड़ली बहिना सम्मेलन के दौरान प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री जी के द्वारा पिछौर को जिला बनाने की घोषणा की गई थी? क्या कलेक्टर शिवपुरी द्वारा मुख्यमंत्री की उक्त घोषणा से शासन/मुख्यमंत्री कार्यालय को अवगत कराया था? यदि नहीं, तो क्यों? इस संबंध में कलेक्टर शिवपुरी द्वारा मुख्यमंत्री कार्यालय/सामान्य प्रशासन विभाग से किये गये पत्राचार की प्रति भी उपलब्ध करावें। (साक्ष्य के रूप में विडियो रिकॉर्डिंग एवं समाचार पत्र की छायाप्रति) भी मौजूद है जो कि आपके द्वारा मांगे जाने पर प्रस्तुत कर दी जावेगी। (ख) क्या उक्त घोषणा पिछौर को जिला बनाने के लिये मना किया जा रहा है, जिससे क्षेत्र की जनता काफी आक्रोशित है? (ग) पिछौर को कब तक जिला बनाया जायेगा, जिससे कि प्रश्नकर्ता क्षेत्र की जनता को अवगत करा सके और अगर नहीं बनाया जाता है तो क्यों नहीं?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) एवं (ग) उत्तरांश 'क' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नियम विरूद्ध नर्सिंग होमों का संचालन
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
7. ( *क्र. 2892 ) श्रीमती ललिता यादव : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छतरपुर शहर व जिलों में कितने नर्सिंग होम संचालित हैं? उनके नाम, संचालनकर्ता का नाम एवं शासन द्वारा प्रदान किये गये पात्रता रजिस्ट्रेशन की प्रति सहित पृथक-पृथक स्थानवार बतायें। (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में संचालित नर्सिंग होम में कार्यरत चिकित्सक का नाम, पात्रता प्रमाण-पत्र, नर्सिंग स्टाफ सहित पृथक-पृथक स्थानवार बतायें। (ग) छतरपुर शहर एवं जिले में अवैध रूप से संचालित नर्सिंग होम पर दिनांक 01 अप्रैल, 2022 से प्रश्न दिनांक तक किस-किस अधिकारी द्वारा निरीक्षण किया गया? उनके नाम, पद व की गई कार्यवाही सहित बताएं। (घ) क्या ऐसे भी नर्सिंग होम हैं, जिनका संचालन शासकीय चिकित्सक कर रहे हैं? नाम, पद, स्थानवार बतायें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) छतरपुर शहर एवं जिले में कुल 26 नर्सिंग होम संचालित हैं। नर्सिंग होम के नाम, संचालनकर्ता का नाम एवं शासन द्वारा प्रदान किये गये पात्रता रजिस्ट्रेशन की प्रति सहित स्थानवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में संचालित नर्सिंग होम के कार्यरत चिकित्सकों एवं नर्सिंग स्टाफ की नामवार एवं स्थानवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। चिकित्सकों की पात्रता संबंधी म.प्र. आयुर्विज्ञान परिषद का पंजीयन, अतिरिक्त पंजीयन तथा रेसिप्रोकल पंजीयन की जानकारी तथा नर्सिंग स्टाफ की म.प्र. नर्सेस रजिस्ट्रेशन परिषद के प्रमाण-पत्र की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। (ग) छतरपुर शहर एवं जिले में दिनांक 01 अप्रैल, 2022 से प्रश्न दिनांक तक अवैध रूप से संचालित नर्सिंग होम की जानकारी निरंक है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अवैध कॉलोनियों पर कार्यवाही
[राजस्व]
8. ( *क्र. 2607 ) श्री कालु सिंह ठाकुर : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) धार जिले की धरमपुरी विधानसभा में कौन-कौन सी अवैध कॉलोनियाँ हैं? इन अवैध कॉलोनियों के ऊपर शासन द्वारा क्या कार्यवाही की गई है? (ख) किन-किन कॉलोनाइजरों द्वारा विकास की अनुमति ली है और किन-किन के द्वारा विकास की अनुमति नहीं ली गई है? साथ ही यह भी बतावें कि किन-किन के द्वारा अनुमति के बाद भी समय-सीमा में कार्य पूर्ण नहीं किया गया है? (ग) क्या ऐसी भूमियाँ जो आदिवासी से गैर आदिवासी को विक्रय कर 165 (6) (क) की अनुमति ली गई थी? यदि हाँ, तो किन-किन के द्वारा ली गई थी और यदि नहीं, ली गई तो किस कारण? (घ) क्या धरमपुरी विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत आदिवासी की रिकॉर्डेड भूमि स्वामी जनजातीय की भूमि पर गैर आदिवासी का कब्जा है अथवा रहा है, के संबंध में प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही की गई है?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 165 (6) के अंतर्गत अधिसूचित क्षेत्र में अनुसूचित जनजाति वर्ग के व्यक्ति की भूमि गैर अनुसूचित जनजाति को विक्रय पर प्रतिबंध होने से धरमपुरी विधानसभा क्षेत्र में धारा 165 (क) अंतर्गत अनुमति प्रदान नहीं की गई है। (घ) प्रश्नांश ''क'' एवं ''ख'' के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में कोई प्रकरण पंजीबद्ध नहीं हुआ है।
शासकीय तालाब में विधि विरूद्ध किये गये पट्टे को निरस्त किया जाना
[राजस्व]
9. ( *क्र. 2474 ) श्री गिरीश गौतम : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या दिनांक 18.07.2024 को विधानसभा के अतारांकित प्रश्न क्रमांक 3944 के प्रश्न में पूछा गया था कि तहसील मनगवां, जिला रीवा की भूमि खसरा नंबर-80, रकबा 2 एकड़ 50 डिस्मिल भूमि शासकीय तालाब दर्ज है, जिसे बाद में 7 बटांकों में दर्ज कर क्रमश: 80/1, 2 एकड़ 42 डिस्मिल शासन दर्ज है। 80/2, 80/3, 80/4, 80/5 निजी भूमि स्वामी दर्ज है एवं 80/6 तथा 80/7 म.प्र. शासन दर्ज है, वर्ष 2022-23 के कम्प्यूटरीकृत खसरे में कुल 13 बटांक दर्ज है, जिसमें 80/1/2, 80/2, 80/3, 80/4, 80/5/1/1, 80/5/1/2, 80/6/1, 80/6/2, 80/6/3, 80/6/4 एवं 80/7 निजी भूमि स्वामित्व में दर्ज है, का विवरण तथा क्रमांक 80 खतौनी में शासकीय तालाब एवं भीटा दर्ज है, तो क्या बिना नवैयत (Land use) परिवर्तन किये भूमि स्वामित्व को पट्टा दिया जा सकता है, का प्रश्न पूछा गया था तथा प्रस्तुत ध्यानाकर्षण के जवाब में भी जांच कराने का आश्वासन दिया गया था? यदि हाँ, तो क्या जांच हुई? (ख) क्या दिनांक 13.11.2024 रा.नि. मंडल मनगवां द्वारा तहसीलदार मनगवां को 13 बटांकों के खसरे का विवरण रकबे एवं भूमि स्वामी के नाम के साथ प्रतिवेदन प्रेषित किया गया था, जिसके आधार पर तहसीलदार मनगवां द्वारा कलेक्टर रीवा को पत्र प्रेषित कर उल्लेखित किया गया कि उक्त भूमि के नवैयत परिवर्तन की जानकारी दर्ज नहीं पायी गई और नियमानुसार कार्यवाही हेतु प्रेषित है, का पत्र दिया गया था तथा जिला प्रभारी अभिलेखागार को भी पत्र दिनांक 02.07.2024 प्रेषित किया गया था। पटवारी प्रतिवेदन तथा राजस्व निरीक्षण मंडल के कलेक्टर एवं अभिलेखागार को भेजे गये पत्रों की प्रतियां भी उपलब्ध करायेंगे। (ग) उक्त पत्र प्रेषित करने के बाद कलेक्टर रीवा द्वारा क्या कार्यवाही की गई और यदि बिना नवैयत परिवर्तन के शासकीय तालाब तथा भीटा में पट्टा दिये जाने का प्रावधान नहीं है तो अभी तक पट्टा निरस्त क्यों नहीं किया गया था? दिये गये पट्टे से अधिक की भूमि पर कब्जा होने की जांच क्यों नहीं की गई तथा अतिक्रमण क्यों नहीं हटाया गया? इसके लिये कौन जिम्मेदार है तथा कब तक पट्टे निरस्त किये जायेंगे एवं अतिक्रमण हटा दिया जावेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। ग्राम अमिरती के खसरा नंबर 80 में अवैध तरीके से किये गये नामांतरण के संबंध में कलेक्टर जिला रीवा द्वारा राजस्व प्रकरण क्र. 0002/अ-19/मूल/2024-25 दर्ज कर जांच की जा रही है। (ख) पटवारी प्रतिवेदन तथा स्थल निरीक्षण प्रतिवेदन की प्रति संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) कलेक्टर जिला रीवा द्वारा प्रकरण क्रमांक 0002/अ-19/मूल/2024-25 दर्ज कर सभी पक्षकारों को नोटिस जारी कर जांच की जा रही है। जांचोपरांत आवश्यकतानुसार कार्यवाही की जावेगी। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
अतिशेष शिक्षकों की पदस्थापना में परिवर्तन
[स्कूल शिक्षा]
10. ( *क्र. 2815 ) श्री अमर सिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विगत वर्ष में प्रदेश में अतिशेष शिक्षकों की अन्य शाला में काउंसलिंग के माध्यम से पदस्थापना की गई है? यदि हाँ, तो कब-कब की गई? इसके क्या नियम थे? निर्देश की प्रति उपलब्ध करावें। (ख) राजगढ़ जिले की विधानसभा राजगढ़ में कितने अतिशेष शिक्षकों की काउंसलिंग के माध्यम से अन्य शाला में पदस्थापना की गई है? (ग) प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित ऐसे कितने अतिशेष शिक्षक थे, जिनके द्वारा दिनांक 01 फरवरी, 2025 तक अपनी नवीन पदस्थापना स्थल पर उपस्थिति नहीं दी है, जबकि उनको 7 दिवस में संस्था द्वारा ऑनलाईन व ऑफलाइन कार्यमुक्त कर दिया गया था? नाम, पदनाम व संस्था की कारण सहित जानकारी दें। (घ) क्या राजगढ़ विधानसभा अन्तर्गत अतिशेष शिक्षकों की पदस्थापना में परिवर्तन अथवा संशोधन किया गया है? यदि हाँ, तो किन-किन अतिशेष शिक्षकों की पदस्थापना स्थल में परिवर्तन अथवा संशोधन किस कारण किसकी अनुशंसा पर किया गया है? नाम, पदनाम, संस्था का नाम तथा कारण व अनुशंसा सहित जानकारी दें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। माह अगस्त एवं सितम्बर में अतिशेष शिक्षकों की काउंसलिंग के माध्यम से पदस्थापना की गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'एक' अनुसार है। (ख) राजगढ़ जिले के विधानसभा राजगढ़ में 81 अतिशेष शिक्षकों की काउंसलिंग के माध्यम से अन्य शाला में पदस्थापना की गई है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'दो' अनुसार है। (घ) उत्तरांश ''ग'' अनुसार प्रशासकीय आवश्यकता को दृष्टिगत रखते हुए संशोधन किया गया है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
म.प्र. के समस्त जिलों में सी.जी.एच.एस. स्कीम का क्रियान्वयन
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
11. ( *क्र. 2237 ) श्री दिव्यराज सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि क्या केन्द्रीय कर्मचारियों के समान राज्य सरकार के अधीन कर्मचारियों को भी सी.जी.एच.एस. स्कीम के समान कैशलेस इलाज की सुविधा दी जा सकती है? यदि हाँ, तो कब तक इस तरह की स्कीम का लाभ राज्य सरकार के कर्मचारियों को मिल सकेगा?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : वर्तमान में राज्य सरकार के अधीन कर्मचारियों को सी.जी.एच.एस. स्कीम के समान कैशलेस इलाज की सुविधा दिये जाने संबंधी कोई योजना प्रचलन में नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
माध्यमिक और हाई स्कूलों में विज्ञान विषय के पद
[स्कूल शिक्षा]
12. ( *क्र. 2571 ) श्री विपीन जैन : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता के प्रश्न क्रमांक 4060 (अतारांकित), दिनांक 18.07.2024 अनुसार प्रदेश में माध्यमिक और हाई स्कूलों में विज्ञान विषय के पद के संबंध में जानकारी चाही गई थी? (ख) उक्त प्रश्न के बिंदु (क) से बिंदु (ड.) तक यदि जानकारी एकत्र हो गई हो तो उपलब्ध करायें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
विभाग की जानकारी व कार्यवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
13. ( *क्र. 644 ) श्रीमती अनुभा मुंजारे : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विगत पांच वित्तीय वर्षों में कार्यालय मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी बालाघाट में स्टोर इंचार्ज के पद पर कौन पदस्थ था? इनके कार्यकाल के दौरान किन-किन मदों में कितनी-कितनी राशि प्राप्त हुई? प्राप्त राशि से कौन-कौन सी सामग्री क्रय की गयी है? (ख) जी.एन.एम. स्कूल बालाघाट एवं उन्नयन पश्चात नर्सिंग महाविद्यालय हेतु विगत पांच वर्षों में कौन-कौन सी सामग्री क्रय हेतु बजट का आवंटन प्राप्त हुआ है? आवंटन पश्चात कौन-कौन सी सामग्री क्रय की गयी है? संपूर्ण विस्तृत विवरण देवें। क्रय उपरांत क्या सामग्री का भौतिक सत्यापन किया गया है? यदि हाँ, तो कब-कब? वर्तमान में क्या सभी क्रय की सामग्री नर्सिंग महाविद्यालय में है? यदि हाँ, तो विवरण देवें। (ग) उक्त अवधि में पदस्थ स्टोर इंचार्ज के विरूद्ध कब-कब शिकायतें की गयी है? शिकायत की कब जांच की गयी एवं शिकायत के संबंध में विस्तृत जांच प्रतिवेदन उपलब्ध करावें। (घ) जिला चिकित्सालय बालाघाट में नियमित वार्ड बॉंय के कितने पद स्वीकृत हैं? कहां-कहां कार्यरत हैं? कितने वार्ड बॉंय को वार्ड के अतिरिक्त अन्य स्थानों पर किस आदेश से कार्य लिया जा रहा है (आदेश की प्रति देवें) मूल कार्य में कब तक वापस किया जावेगा? नामवार, वार्डवार जानकारी देवें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'', ''ब'' एवं ''स'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' एवं ''ड.'' अनुसार है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''च'' अनुसार है। जी हाँ, विवरण की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''छ'' अनुसार है। जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ज'' अनुसार है। (ग) जी नहीं। कार्यालय सी.एम.एच.ओ. बालाघाट एवं कार्यालय कलेक्टर बालाघाट में कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। (घ) जिला चिकित्सालय बालाघाट में नियमित वार्ड बॉय के स्वीकृत पद-44, कार्यरत-10 एवं रिक्त पद-34 हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''झ'' अनुसार है। एक ही वार्ड बॉय श्री दीपक तोमर, वार्ड बॉय से स्थापना शाखा में कार्य लिया जा रहा है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ट'' अनुसार है। कार्यालय सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक बालाघाट के आदेश क्रमांक/स्था/2025/54 बालाघाट, दिनांक 05.03.2025 के द्वारा श्री दीपक तोमर, वार्ड बॉय को मूल पद पर कार्य करने हेतु आदेशित कर दिया गया है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ठ'' अनुसार है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ढ़'' अनुसार है।
माननीय मुख्यमंत्री को प्रेषित पत्र पर की गई कार्यवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
14. ( *क्र. 480 ) श्री राजेश कुमार शुक्ला : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि प्रश्नकर्ता के द्वारा माननीय मुख्यमंत्री महोदय को प्रेषित पत्र क्र. 561/2024, दिनांक 19.12.2024 के संबंध में की गई कार्यवाही का ब्यौरा क्या है?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : प्राचार्य दंत चिकित्सा महाविद्यालय इंदौर के पत्र दिनांक 28.03.2025 द्वारा जांच समिति गठित कर दी गई है। कार्यवाही प्रचलन में है, जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
पुरानी एवं कच्ची नहरों के जर्जर होने से जल हानि
[जल संसाधन]
15. ( *क्र. 37 ) श्री वीरेन्द्र सिंह लोधी : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बंडा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत चंदिया डैम, कवायला डैम, नारायणपुरा डैम, मंजलाडैम, हनौता डैम, महुमटया डैम एवं वीला डैम से निकलने वाली नहरें कच्ची व पुरानी होने से जर्जर स्थिति में हैं? (ख) क्या उक्त नहरों के जर्जर होने के कारण बड़ी मात्रा में जल हानि हो रही है तथा लीकेज के कारण कुछ स्थानों पर किसानों की खेती पर विपरीत प्रभाव पड़ रहा है? (ग) क्या उक्त नहरों का पक्के निर्माण द्वारा शीघ्र सुदृढ़ीकरण करवाया जाना आवश्यक है? (घ) जल हानि एवं किसानों की समस्या को देखते हुये क्या नहरों का पक्का निर्माण शीघ्र करवाया जायेगा? (ड.) क्या यह कार्य इस वर्ष वर्षाकाल के पूर्व करवाया जाना संभव है? (च) नारायणपुरा हनौता एवं कवायला डैम की नहरें अत्यधिक जर्जर हैं, क्या इस वर्षाकाल के पूर्व इन डेमों की नहरों का सुदृढ़ीकरण करवाया जायेगा? (छ) विधानसभा क्षेत्र बण्डा की समस्त जर्जर एवं कच्ची नहरों को पक्का करने में कितना समय लगने की संभावना है?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) एवं (ख) जी नहीं। (ग) जी नहीं, चंदिया डैम, वाबिर मटिया डैम एवं बीला डैम की नहरों का आंशिक लाइनिंग कार्य पूर्व में ही किया जा चुका है। शेष में आवश्यकतानुसार नहरों के पक्के निर्माण का कार्य प्रस्तावित किया जाना प्रतिवेदित है। (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार है। (ड.) जी नहीं। (च) जी नहीं, नारायणपुरा हनौता एवं कवायला डैम की नहरें आंशिक क्षतिग्रस्त हैं, आवश्यकतानुसार नहरों का रख-रखाव/मरम्मत वर्षाकाल के पूर्व कराया जाना प्रतिवेदित है। (छ) निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
भूमि का जन उपयोग
[राजस्व]
16. ( *क्र. 2513 ) डॉ. राजेन्द्र पाण्डेय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जावरा चौपाटी बस स्टैंड स्थित सर्वे नंबर 225 एवं 226 शासकीय घोषित होकर सर्वे नंबर 224 का न्यायालय स्वामित्व संबंधी निर्धारण नहीं हो सका है? (ख) यदि हाँ, तो बढ़ती हुई जनसंख्या एवं विस्तारित हो रहे नगर की जन आवश्यकताओं की पूर्ति किये जाने के साथ ही अनेक शासकीय कार्यों को किये जाने हेतु भी उल्लेखित सर्वे नंबरों की भूमियां शासनाधीन होकर संरक्षित होना आवश्यक है? (ग) सर्वे नंबर 225 एवं 226 जो की शासनाधीन घोषित होकर "यह भूमि शासन की है" का सूचना बोर्ड भी उक्त सर्वे नंबर की भूमि पर विगत वर्षों में शासन/विभाग द्वारा लगाया गया था तो बताएं कि प्रश्नाधीन उल्लेखित दोनों सर्वे नंबर के अंतर्गत आई समस्त भूमि का सीमांकन किया गया तो वर्तमान में भूमि की क्या स्थिति है? (घ) क्या विगत कई वर्षों से सर्वे नंबर 224 का जनहित में अधिग्रहण कर नगर पालिका परिषद जावरा को जन कार्यों हेतु दिया जाये, तत्संबंधी नगर पालिका परिषद जावरा का ठहराव प्रस्ताव एवं संकल्प भी आवेदन के साथ संलग्न किया गया एवं तत्कालीन समय में भू भाटक का निर्धारण भी किया जाकर भूमि को नगरपालिका जावरा को दिये जाने हेतु कार्यवाही प्रचलन में आई तो आगामी कार्यवाही कब तक की जा सकेगी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। सर्वे नंबर 224, 225, 226 पर माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ इन्दौर में याचिका क्रमांक WP 29945/2022, WP 17643/2021, WP 2922/2018, WP 19/2005 प्रचलित है एवं माननीय अपर जिला न्यायाधीश न्यायालय जावरा में RCA 349/2024 वाद प्रचलित है। (ख) म.प्र. भू राजस्व संहिता 1959 (यथा संशोधित वर्ष 2018) की धारा 233-नगरीय क्षेत्र में दखल रहित भूमि का अभिलेख तथा 233 (क)-नगरीय क्षेत्र में लोक प्रयोजनों के लिये भूमि को पृथक रखे जाने हेतु प्रावधान निहित हैं। (ग) जी हाँ। शासकीय नंबरों का सीमांकन किया गया। वर्तमान भूमि की स्थिति सर्वे नंबर 225/1, 225/2 निजी दर्ज होकर मौके पर व्यवसायिक दुकानें बनी हुई हैं। सर्वे नंबर 226 के शासकीय बटांकन की वर्तमान मौका स्थिति 226/1/3, 226/2, 226/3/1, 226/3/2, 226/4 मौके पर बस स्टैंड व्यवसायिक दुकानें रहवासी मकान खण्डहर व खुली भूमि है। सर्वे नंबर 226 के निजी बटा नंबरों 226/1/4, 226/5, 226/6, 226/7 व 226/8 पर वर्तमान में मौके पर व्यवसायिक दुकानें बनी हुई हैं। वर्तमान खसरे की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (घ) सर्वे नंबर 224, 225, 226 पर माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ इन्दौर में याचिका क्रमांक WP 29945/2022, WP 17643/2021, WP 2922/2018, WP 19/2005 प्रचलित है एवं माननीय अपर जिला न्यायाधीश न्यायालय जावरा में RCA 349/2024 वाद प्रचलित होने से भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही नहीं की गई है।
अवैधानिक कब्जा हटाने एवं राजस्व रिकॉर्ड में सुधार
[राजस्व]
17. ( *क्र. 1987 ) श्री सुरेन्द्र सिंह गहरवार : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सतना जिले में अवैधानिक कब्जा हटाने एवं राजस्व रिकॉर्ड में सुधार संबंधी विधानसभा प्रश्न क्रमांक 3225, दिनांक 16 मार्च, 2023 में आश्वासन लंबित है? प्रकरण की पूर्ण जानकारी, निराकरण सहित दें। (ख) क्या वर्ष 1961-62 में राजस्व न्यायालय नायब तहसीलदार रघुराजनगर सतना के आदेश दिनांक 22.4.1962 द्वारा तीन व्यक्तियों के मध्य भूमि-स्वामी स्वत्व दर्ज किये गये थे? आदेश की प्रति दें। उक्त आदेश किस स्तर/सक्षम न्यायालय से निरस्त किये गये हैं? यदि हाँ, तो आदेशों की प्रतियां देवें। (ग) क्या प्रश्नांश (क) अनुसार प्रकरण निराकरण हेतु वर्ष 2020 में 4 सदस्यीय टीम कलेक्टर सतना द्वारा तैयार की गई? 5 वर्ष से अधिक समय से निरंतर मात्र स्मरण-पत्र जारी किये जा रहे हैं? जांच दल की लापरवाही एवं स्वेच्छाचारिता से प्रकरण लंबित हैं? 5 वर्ष की लंबी अवधि में भी जांच पूर्ण न करने का क्या कारण है? क्या वर्षों-वर्षों तक प्रकरण लंबित रखने के लिये जांच दल दोषी नहीं है? क्या जांच दल के अधिकारियों पर कठोर दण्डात्मक कार्यवाही की जायेगी? यदि नहीं, तो क्यों? जांच कब तक पूर्ण करायी जायेगी? (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) के प्रकाश में कब तक अवैधानिक कब्जा हटाकर राजस्व अभिलेखों में सुधार कर दिया जायेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। जांच प्रचलित है। गठित टीम के जांच प्रतिवेदन प्राप्त होने के उपरांत अग्रिम कार्यवाही की जा सकेगी। (ख) प्रश्नांश (ख) में राजस्व प्रकरण क्रमांकों का उल्लेख नहीं होने से दायरा एवं दाखिला दिनांक ज्ञात नहीं किया जा सकता। अत: जानकारी दिया जाना संभव नहीं हैं। (ग) जी हाँ। वर्ष 2020 में प्रकरण के निराकरण हेतु 04 सदस्यीय जांच दल का गठन किया गया था। यह सही है कि बार-बार स्मरण-पत्र जारी होने के बाद भी आज दिनांक तक जांच प्रतिवेदन प्राप्त नहीं हुआ है। कार्यवाही हेतु जांच दल को दिनांक 11.03.2025 को नोटिस जारी कर जांच प्रतिवेदन 15 दिवस के अन्दर प्रस्तुत करने के लिये निर्देशित किया गया है। (घ) उत्तरांश 'ग' अनुसार।
विधानसभा क्षेत्र घट्टिया की लोक स्वास्थ्य सुविधाएं
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
18. ( *क्र. 2131 ) श्री सतीश मालवीय : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) घट्टिया विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत कितने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र, कितने प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, कितने उप स्वास्थ्य केंद्र संचालित किये जा रहे हैं? उक्त संचालित केंद्रों में कुल कितने पद चिकित्सक, महिला चिकित्सक, विशेषज्ञ चिकित्सक, नर्सिंग स्टाफ, लेब टेक्नीशियन सहित अन्य कुल कितने पद कहाँ-कहाँ रिक्त हैं? रिक्त पदों पर आगामी सिंहस्थ 2028 को देखते हुए कब तक पदस्थी की जायेगी? (ख) विधानसभा क्षेत्र घट्टिया के कितने स्वास्थ्य केंद्रों के पदस्थ डॉक्टरों एवं अन्य स्टाफ को अन्यत्र संयोजित किया गया है? नाम, पद, स्थान की सूची सहित संपूर्ण जानकारी उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में अन्य स्थान पर चिकत्सकों एवं अन्य स्टाफ को संयोजित करने के क्या कारण थे? क्या संयोजन करने से पदस्थ स्थान की स्वास्थ्य सेवाएँ प्रभावित नहीं हो रही है? उक्त संयोजन के लिये कौन दोषी है? संयोजन समाप्त कर सभी चिकत्सकों एवं अन्य स्टाफ को उनके मूल पदस्थी स्थान पर कब तक भेजा जायेगा? (घ) प्रश्न (क) के संदर्भ में उन्नयन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में कब तक उन्नयन किया जायेगा? (ड.) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पानबिहार को 05 बेड से बढ़ाकर 10 बेड तक करने नवीन भवन कब तक स्वीकृत किया जायेगा?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) घट्टिया विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत 02 सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, 05 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र एवं 50 उप स्वास्थ्य केन्द्र संचालित हैं। मानव संसाधन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। पदपूर्ति की कार्यवाही एक निरंतर विभागीय प्रक्रिया है, निश्चित समयवाधि बताया जाना संभव नहीं है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ग) अन्य स्वास्थ्य संस्थाओं में स्वास्थ्य सेवायें प्रदाय किये जाने के दृष्टिगत कार्य की सुविधा की दृष्टि से शासकीय सेवकों को कार्य करने हेतु आदेशित किया गया है। जी नहीं। कार्यवाही का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जिला उज्जैन के आदेश क्रमांक 4847, दिनांक 11.03.2025 के द्वारा समस्त अन्यत्र कार्यरत शासकीय सेवकों की पदस्थापना निरस्त करते हुये मूल पदस्थापना पर कार्य किये जाने हेतु आदेशित किया गया है। पत्र की प्रति जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। (घ) वर्तमान में वित्त विभाग म.प्र. शासन द्वारा लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग के लिये पूंजीगत कार्यों हेतु सूचकांक 3 निर्धारित किया गया है। निर्धारित सूचकांक अनुसार वर्तमान में विभाग अंतर्गत बैंक ऑफ सेंक्शन ऋणात्मक है, तद्नुसार उन्नयन किया जाना संभव नहीं है। (ड.) उत्तर प्रश्नांश (घ) के उत्तर अनुसार।
पूजा में प्रयुक्त नकली घी का प्रयोग
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
19. ( *क्र. 78 ) डॉ. सीतासरन शर्मा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश में पूजा में प्रयोग किया जाने वाला नकली घी ''दीपद्रव्य'' के नाम से बेचा जा रहा है? (ख) यदि हाँ, तो किन-किन कंपनियों द्वारा? नाम पते सहित जानकारी दें। (ग) क्या दीपद्रव्य में सम्मिलित पदार्थों (इनग्रेडिऐंट) की जानकारी भी अंकित नहीं है? यदि हाँ, तो क्या यह जानकारी दी जाना आवश्यक है? (घ) क्या प्रश्नकर्ता द्वारा कलेक्टर नर्मदापुरम एवं अनुविभागीय अधिकारी, इटारसी को दीपद्रव्य के संबंध में अवगत कराते हुए कार्यवाही का अनुरोध अक्टूबर 2024 में किया था? यदि हाँ, तो शासन द्वारा प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित कंपनियों के खिलाफ कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो क्या?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी नहीं। (ख) एवं (ग) उत्तरांश ''क'' अनुसार। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) जी हाँ। खाद्य सुरक्षा अधिकारियों द्वारा सघन निरीक्षण किया गया एवं संबंधित पदार्थ की जांच हेतु दिनांक 10.01.2025 को नमूना संग्रहण, नर्मदा सेल्स एजेन्सी इटारसी से राज्य खाद्य प्रयोगशाला प्रेषित कर खाद्य विश्लेषक से अभिमत चाहा गया था। उक्त पदार्थ Food Safety and Standards Authority of India (FSSAI) की किसी फूड केटेगरी में सम्मिलित न होने के कारण क्वालिटी स्टेन्डर्ड उपलब्ध नहीं होने से नमूना अखाद्य पदार्थ की श्रेणी में वर्णित है।
फर्जी अल्पसंख्यक संस्थाओं पर एफ.आई.आर.
[स्कूल शिक्षा]
20. ( *क्र. 1589 ) श्री जगन्नाथ सिंह रघुवंशी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता के अतारांकित प्रश्न क्रमांक 3057, दिनांक 10.07.2024 के प्रश्नांश (घ) के उत्तर में विभाग के द्वारा यह बताया गया है कि अल्पसंख्यक विद्यार्थियों के अनुपात के संबंध में कोई मापदंड स्थापित न होने से प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित प्रश्नांश (क) के परिशिष्ट 4 में विगत 04 वर्षों में किसी भी स्कूल में न्यूनतम 25 प्रतिशत अल्पसंख्यक छात्र प्रवेशित नहीं पाये गये? (ग) यदि हाँ, तो प्रश्नांश (क) के परिशिष्ट 8 के पृष्ठ क्रमांक 5 में पात्रता एवं शर्तें 19.3 में अल्पसंख्यक छात्र संख्या 25 प्रतिशत से कम नहीं होगी, स्पष्ट उल्लेखित है? (घ) यदि हाँ, तो क्या जिला कलेक्टर इस मामले में भी दंडात्मक कार्यवाही करेंगे या नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) संदर्भित विधानसभा प्रश्न के परिशिष्ट-4 के क्रमांक 3 पर अंकित क्राईस्ट चर्च को-एड में केवल वर्ष 2021-22 में ही 25 प्रतिशत अल्पसंख्यक विद्यार्थियों की संख्या का उल्लेख है, अन्य 03 वर्षों में नहीं है। शेष 06 संस्था में किसी भी वर्ष 25 प्रतिशत अल्पसंख्यक छात्र प्रवेशित नहीं पाये गये। (ग) संदर्भित प्रश्न के उत्तर में परिशिष्ट-8 न होने के कारण शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश ''ग'' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
त्रुटिवश दर्ज हुए राजस्व रिकॉर्ड के प्रकरण
[राजस्व]
21. ( *क्र. 2832 ) श्री कमलेश्वर डोडियार : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला रतलाम के सैलाना विधानसभा क्षेत्र में वर्ष 2011 से प्रश्न दिनांक तक क्षेत्र के आदिवासी किसान अनपढ़ होने के कारण राजस्व रिकॉर्ड की वास्तविक जानकारी नहीं होने के कारण उक्त कृषि भूमि पर रक्त संबंधी या अन्य व्यक्तियों का राजस्व रिकॉर्ड में त्रुटिवश वर्षों से नाम दर्ज है? इस कारण वर्तमान में बहुत ज्यादा भूमि संबंधी रिकॉर्ड को लेकर गंभीर प्रकार के विवाद उत्पन्न हो रहे हैं? इस प्रकार के विवाद तहसील व अनुविभागीय राजस्व कार्यालयों में वर्ष 2011 से प्रश्न दिनांक तक प्राप्त आवेदनों की जानकारी पृथक-पृथक वर्षवार बतावें। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित राजस्व विभाग द्वारा दल गठन कर गाँव-गाँव जाकर भौतिक सत्यापन करते हुए रिकॉर्ड दुरस्त कर वास्तविक भूमि स्वामी के नाम राजस्व रिकॉर्ड में दर्ज किया जायेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों नहीं? (ग) विभाग द्वारा वर्ष 2018 से वेब जी.आई.एस. स्कीम लागू होने के पूर्व में भूमि स्थान के सर्वे क्र. को जी.आई.एस. में अलग स्थान में दिखाने की त्रुटि सुधार हेतु सैलाना विधानसभा क्षेत्र में कितने आवेदन प्राप्त हुए? नाम, ग्राम, भूमि सर्वे क्र. सहित जानकारी देवें और कितने आवेदनों में त्रुटि सुधार किया गया है? नाम, ग्राम, भूमि सर्वे क्र. सहित जानकारी पृथक-पृथक बतावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जिला रतलाम के सैलाना विधानसभा क्षेत्र में वर्ष 2011 से प्रश्न दिनांक तक अनुविभागीय राजस्व कार्यालय में त्रुटि सुधार के वर्षवार आवेदन निम्नानुसार है :-
वर्ष |
प्राप्त आवेदनों की संख्या |
2011-12 |
15 |
2012-13 |
20 |
2013-14 |
49 |
2014-15 |
63 |
2015-16 |
138 |
2016-17 |
51 |
2017-18 |
53 |
2018-19 |
18 |
2019-20 |
33 |
2020-21 |
65 |
2021-22 |
298 |
2022-23 |
317 |
2023-24 |
94 |
2024-25 |
97 |
(ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित प्रकरणों का म.प्र.भू.रा. संहिता 1959 के प्रावधान अंतर्गत नियमानुसार राजस्व निरीक्षक, मौजा पटवारी से जांच रिपोर्ट मय पंचनामा तलब कर एवं तहसीलदार से प्राप्त जांच रिपोर्ट के आधार पर निराकरण किया जाकर रिकॉर्ड दुरूस्ती की गई है। वर्तमान में वर्ष 2024-25 के 23 प्रकरण प्रचलित हैं, जो आगामी 1 माह में निराकृत कर दिये जायेंगे। (ग) वर्ष 2018 से अनुविभाग सैलाना में भूमि सर्वे क्रमांक को अन्य स्थान पर दिखाने संबंधी त्रुटि, नक्शा दुरूस्ती के प्रकरण की जानकारी नाम, ग्राम, भूमि सर्वेवार जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
पर्यटन स्थल भोजपुर के विकास हेतु प्रयास
[पर्यटन]
22. ( *क्र. 2726 ) श्री सुरेन्द्र पटवा : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला रायसेन के पर्यटन स्थल भोजपुर के विकास हेतु क्या प्रयास किये गये हैं? कितनी राशि की मांग शासन से की गई है? (ख) भोजपुर पर्यटन क्षेत्र को विकसित करने हेतु क्या कोई योजना विचाराधीन है? यदि हो तो जानकारी दें।
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) भोजपुर को यूनेस्को विश्वधरोहरों के संभावित सूची में प्रस्ताव प्रेषित कर सम्मिलित किया गया है। (ख) भोजपुर पर्यटन क्षेत्र को विकसित करने हेतु एक रोप-वे निर्माण की योजना है, जिसकी स्वीकृति भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण, नई दिल्ली के समक्ष विचाराधीन है।
छात्रावासों का संचालन
[स्कूल शिक्षा]
23. ( *क्र. 2936 ) श्री उमाकांत शर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विदिशा जिले में विभाग के कहां-कहां छात्रावास संचालित हैं? दिनांक 01 अप्रैल, 2019 से प्रश्नांकित दिनांक तक किन-किन मदों पर राशि जारी की गई तथा किन-किन मदों में राशि व्यय की गई? कैशबुक, बिल-व्हाउचर की छायाप्रति उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में छात्रावास में रहने वाले विद्यार्थियों की कक्षावार, छात्रावासवार जानकारी उपलब्ध करावें। (ग) छात्रावासों में वार्डन, सहायक वार्डन, अतिथि शिक्षक नियुक्ति के क्या नियम निर्देश, आदेश हैं? छायाप्रति उपलब्ध करावें तथा छात्रावासों में पदस्थ समस्त स्टाफ की जानकारी उपलब्ध करावें। वर्षों से पदस्थ वार्डनों को कब तक हटा दिया जावेगा? (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) के संदर्भ में उक्त छात्रावासों का निरीक्षण किन-किन अधिकारियों द्वारा कब-कब किया गया? अधिकारी का नाम, पदनाम, निरीक्षण दिनांक, निरीक्षण प्रतिवेदन की छायाप्रति एवं छात्रावास में आर्थिक अनियमितताओं की कार्यवाही की जानकारी उपलब्ध करावें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे में परिशिष्ट (पैनड्राईव) के प्रपत्र 1 एवं 2 पर है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे में परिशिष्ट (पैनड्राईव) के प्रपत्र 3 पर है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट (पैनड्राईव) के प्रपत्र 4 एवं 5 पर है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट (पैनड्राईव) के प्रपत्र 6 पर है।
चिकित्सालय का स्थानांतरण
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
24. ( *क्र. 2838 ) श्री अजय अर्जुन सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या चुरहट विधान सभा क्षेत्र में रामपुर नैकिन में स्थित शासकीय चिकित्सालय को अन्यत्र स्थानांतरित किया जा रहा है? (ख) यदि हाँ, तो किस स्थान पर स्थानांतरित किया जा रहा है? (ग) उपरोक्त शासकीय चिकित्सालय को स्थानांतरित करने का क्या अन्यत्र कारण है?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख) नवीन 100 बिस्तरीय सिविल अस्पताल भवन निर्माण हेतु नगर परिषद रामपुर नैकिन के खसरा क्र. 162 एवं 163/3 कुल रकबा 4.33380 भूमि चिन्हांकित की गई है। (ग) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र रामपुर नैकिन का उन्नयन 100 बिस्तरीय अस्पताल में किये जाने हेतु प्रशासकीय स्वीकृति जारी की गयी है, किन्तु वर्तमान अस्पताल परिसर में पर्याप्त भूमि उपलब्ध नहीं है, अतः नवीन सिविल अस्पताल को अन्यत्र स्थान पर निर्मित किया जा रहा है।
शैक्षणिक अमले को अन्य प्रभार
[स्कूल शिक्षा]
25. ( *क्र. 2842 ) श्री दिनेश गुर्जर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मुरैना जिले के शैक्षणिक अमले को प्रभारी अधिकारी के रूप में नियुक्त किये जाने के बाद, उन्हें कब तक मूल संस्था में वापिस किया जायेगा? उनके प्रभार संबंधित आदेश की प्रति उपलब्ध कराएं। (ख) क्या मुरैना जिले में शैक्षणिक अमले के प्रभारी अधिकारी बनने पर अतिथि शिक्षकों की नियुक्ति से शासन को अतिरिक्त व्यय हुआ है? इस दोहरे व्यय से बचने के लिये क्या शासन कोई कठोर कदम उठायेगा? (ग) क्या पूर्व में आसंजित समाप्त करने और प्रभारी अधिकारी बनाने के आदेशों का पालन नहीं किया गया? अगर नहीं, तो क्या उनके खिलाफ कोई कार्यवाही होगी? (घ) क्या लोक शिक्षण संचालनालय के आदेशों के बावजूद, आसंजन के वेतन का भुगतान आहरण संवितरण अधिकारी के वेतन से किया गया? उक्त अनियमितता के दोषियों के खिलाफ कब तक कार्यवाही की जायेगी? (ड.) क्या मुरैना जिले के समस्त शिक्षकों का आसंजन और प्रभारी अधिकारी बने शिक्षकों को गैर-शैक्षिक कार्य से कब तक उनकी मूल पदस्थापना पर वापिस किया जायेगा? मूल पदस्थापना में वापसी के आदेशों की कॉपी उपलब्ध कराएं।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) मुरैना जिले में 01 प्राचार्य उ.मा.वि. एवं 01 उच्च माध्यमिक शिक्षक को पद रिक्तता एवं कार्य सुविधा की दृष्टि से अपने कार्य के साथ-साथ प्रभारी अधिकारी के रूप में कार्य संपादन हेतु नियत किया गया है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। प्रभार संबंधी आदेशों की प्रति संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) कार्य के साथ-साथ प्रभारी अधिकारी नियत किये जाने से वेतन पर अतिरिक्त व्यय नहीं हुआ। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश "ख" के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश "क" में अंकित दोनों लोक सेवकों का वेतन उनकी मूल पदस्थी संस्था से आहरित किया जा रहा है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ड.) उत्तरांश "क" अनुसार है।
भाग-2
नियम
46 (2) के
अंतर्गत
अतारांकित
प्रश्नोत्तर
के रुप में
परिवर्तित
तारांकित
प्रश्नोत्तर
दोषियों
पर दंडात्मक
कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
1. ( क्र. 12 ) श्री महेश परमार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता के प्रश्न क्रमांक 147 दिनांक 08/07/24 के भाग-ग की जांच कर संयुक्त संचालक लोक शिक्षण संभाग उज्जैन ने प्रतिवेदन क्रमांक 523 दिनांक 07/08/24 में निःशुल्क शिक्षा अधिकार अधिनियम की धारा 27 के उल्लंघन का दोषी तत्कालीन कलेक्टर एवं जिला शिक्षा अधिकारी को पाया हैं? यदि हाँ, तो अखिल भारतीय सेवा (आचरण) नियम 1968 के तहत दोषी कलेक्टर तथा मध्यप्रदेश सिविल सेवा (आचरण) 1965 के नियम 3 के तहत जिला शिक्षा अधिकारी उज्जैन को जांच प्रतिवेदन में दोष सिद्ध होने पर दंडात्मक कार्रवाई में विलंब क्यों किया जा रहा है? (ख) क्या स्कूल शिक्षा विभाग के सचिव द्वारा मध्यप्रदेश कार्य नियम 12 के प्रावधान एवं सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा जारी गाइड-लाइन एवं निर्देश दिनांक 27 अप्रैल 2022, क्रमांक सी- 6-02/2022/3/1 विभागीय जांचों का निर्धारित समयावधि में निपटारा एवं प्रशासन के विभिन्न स्तरों पर दायित्वों के निर्वहन के लिए समय-सीमा का निर्धारण निर्देश क्रमांक एफ 11-18/2009/1/9 भोपाल दिनांक 21/02/2022 का पालन नहीं किया गया हैं? क्या इस कारण दोषी अधिकारी दंडित नहीं हुए? (ग) क्या आयुक्त लोक शिक्षण भोपाल ने प्रश्नकर्ता के विधानसभा प्रश्नों को देखते हुए आदेश क्रमांक स्था.-03/सी -03/237/वि.स./2023/971 भोपाल दिनांक 28/06/23 को जारी आदेश में धारा 27 के उल्लंघन पर गलत आचरण पर दोषी अधिकारियों पर दंडात्मक कार्यवाही नहीं की?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जांच प्रतिवेदन संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। प्रारंभिक जांच प्रतिवेदन संलग्न परिशिष्ट अपर्याप्त/अपूर्ण है। विस्तृत जांच के निर्देश दिये गये है। (ख) एवं (ग) उत्तरांश ''क'' अनुसार शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जिला नर्मदापुरम में चकबंदी को पूरा करना
[राजस्व]
2. ( क्र. 80 ) डॉ. सीतासरन शर्मा : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या चकबंदी अनुसार नर्मदापुरम जिले के 80 ग्रामों में नक्शा संशोधित न होने से उत्पन्न विवाद, के निराकरण के संबंध में प्रश्नकर्ता द्वारा की गयी शिकायत के संबंध में मुख्य सचिव, महोदय द्वारा प्रमुख सचिव राजस्व को वर्ष 2024 में लिखा था। (ख) क्या कलेक्टर, नर्मदापुरम के पत्र क्र. 1880/अ.भू.अ./चकबंदी/2023 नर्मदापुरम दिनांक 009.09.2023 से आयुक्त भू-अभिलेख को HIGH RESOLUTION SATELITE IMAGE से नक्शा एवं अधिकार अभिलेख निर्माण करने हेतु आवश्यक संसाधन एवं बजट उपलब्ध कराने हेतु लिखा जा चुका है। (ग) यदि हाँ, तो प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित पत्रों के संबंध में प्रमुख सचिव, राजस्व/आयुक्त भू-अभिलेख को प्रश्नकर्ता के वर्ष 2024 में कितने पत्र प्राप्त हुए। उक्त पत्रों पर क्या कार्यवाही की गयी। पत्र प्राप्ति एवं की गयी कार्यवाही से प्रश्नकर्ता को कब-कब अवगत कराया। (घ) नर्मदापुरम जिले के 80 ग्रामों की चकबंदी कब तक हो सकेगी। (ड.) क्या प्रश्नकर्ता द्वारा जनवरी 2025 में कलेक्टर, नर्मदापुरम को पत्र लिखकर उक्त 80 ग्रामों जिनमें चकबंदी का कार्य अधूरा हैं, पूर्ण होने तक राजस्व न्यायालयों (तहसीलदार/ अनुविभागीय अधिकारी एवं अपर कलेक्टर) में निर्णयों को लंबित रखे जाने का अनुरोध किया था। यदि हाँ, तो इस संबंध में क्या कार्यवाही की गयी।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। बजट आवंटन संबंधी कार्यवाही प्रचलित है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) जी नहीं। उत्तरांश ''क'' के प्रकाश में प्रश्नकर्ता का कोई पत्र प्राप्त नहीं हुआ है। शेष कार्यवाही प्रचलित है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (घ) भू-सर्वेक्षण का कार्य नगरेत्तर मार्गदर्शिका एवं भू-सर्वेक्षण नियम 2020 में दिए गए प्रावधानों एवं वृहद स्वरुप का होने से पूर्ण होने की तिथि बताया जाना संभव नहीं हैं। (ड.) उत्तरांश ''ग'' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
600 बिस्तरीय चिकित्सालय की स्वीकृति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
3. ( क्र. 101 ) श्री हेमन्त विजय खण्डेलवाल : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बैतूल जिले के जिला चिकित्सालय बैतूल में लगभग 600 मरीजों को भर्ती रखकर उपचारित किये जाने हेतु पर्याप्त आधारभूत सुविधायें उपलब्ध हैं? (ख) यदि हाँ, तो जिला चिकित्सालय बैतूल को 600 बिस्तरीय चिकित्सालय की स्वीकृति कब तक प्रदान की जावेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी नहीं, वर्तमान में जिला चिकित्सालय बैतूल 300 बिस्तरीय स्वीकृत है तथा चिकित्सालय में 300 रोगियों को भर्ती रखकर उपचारित किये जाने हेतु सुविधायें उपलब्ध है। (ख) उत्तरांश ''क'' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
कम दर्ज संख्या वाली शालाओं को मर्ज किया जाना
[स्कूल शिक्षा]
4. ( क्र. 104 ) श्री हेमन्त विजय खण्डेलवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बैतूल के नगरीय क्षेत्रो में विभाग द्वारा संचालित शालाओं में 50 से कम छात्र/छात्रायें अध्ययनरत है? यदि हाँ, तो ऐसी शालाओं की सूची उपलब्ध करायें? (ख) क्या इन शालाओं को पास की अन्य शालाओं में मर्ज किये जाने की शासन की कोई योजना है? यदि हाँ, तो ऐसी शालाओं को कब तक मर्ज कर दिया जायेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) :(क) जी हाँ। हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी की जानकारी निरंक। प्राथमिक एवं माध्यमिक की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) विभागीय आदेश क्र/एफ 44-19/2018/20-2 भोपाल, दिनांक 5/9/2018 के प्रावधान अनुसार 150 मीटर की परिधि में संचालित शालाओं को एक परिसर एक शाला के रूप में मर्ज करने का प्रावधान है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
सिंचाई जलाशयों से सिंचाई न होना
[जल संसाधन]
5. ( क्र. 229 ) श्री ओम प्रकाश धुर्वे : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला डिंडौरी के अंतर्गत कौन-कौन से 5 जलाशय ऐसे हैं जिनसे सिंचाई नहीं होती इसके कारण एवं ठेकेदारों द्वारा अधूरा या घटिया निर्माण के कारण सिंचाई न होने के लिऐ क्या-क्या कार्यवाही की गई? (ख) 2020 से आज तक ENDM द्वारा किन 5 जलाशयों के गेटों का मरम्मत किया गया? (ग) जिला डिंडौरी में गेट खराब होने से कितने जलाशयों से सिंचाई नहीं हो पा रहीं है? कब तक सुधार किया जायेगा। (घ) जिले के दूधी मझौली बांध से जल रिसाव के कारण लगभग 100 एकड़ जमीन दल-दल हो गया है। कब तक मरम्मत कर दिया जावेगा?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जिला डिंडौरी के जल संसाधन संभाग, डिंडौरी अंतर्गत 05 जलाशय हैं जिनमें रूपांकित सिंचाई क्षमता अनुसार सिंचाई नहीं हो पाना प्रतिवेदित है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-1 अनुसार है। (ख) वर्ष 2020 से आज दिनांक तक मांग/शिकायत अनुसार विद्युत यांत्रिकी विभाग द्वारा गेटों का मरम्मत कार्य किया जाना प्रतिवेदित है। वर्षवार सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-2 अनुसार है जिसमें उक्त 5 जलाशय भी सम्मिलित है। (ग) गेट ख़राब होने से 07 जलाशयों में सिंचाई प्रभावित होना प्रतिवेदित है। विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-3 अनुसार है। (घ) दूधी मझोली बांध (सिलघटी जलाशय) का निर्माण कार्य वर्ष 2011 में किया गया है। बांध की longitutinal drains, cross drains क्षतिग्रस्त हो जाने के कारण बांध के फ़िल्टर का पानी खेतों में जमा होना प्रतिवेदित है। जिससे खेतों में नमी बनी रहती है। सुधार कार्य का प्राक्कलन मैदानी स्तर पर तैयार किया जाना प्रतिवेदित है, स्वीकृति प्राप्त होने के पश्चात सुधार कार्य कराया जाना संभव होगा।
कुकर्रा जलाशय से सिंचाई
[जल संसाधन]
6. ( क्र. 230 ) श्री ओम प्रकाश धुर्वे : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला डिण्डौरी दनदना नदी पर निर्मित कुकर्रा जलाशय से कितने हेक्टेयर में सिंचाई हो रही है, नहीं तो दोषी पर क्या कार्यवाही की गई? (ख) उक्त जलाशय के नहरों के अधूरा एवं घटिया निर्माण के लिए ठेकेदार एवं अधिकारी पर कार्यवाही क्यों नहीं की गई? (ग) देवरगढ़ जलाशय के नहरों से रिसाव के कारण हजारों एकड़ भूमि दल-दल हो गया एवं पानी भराव होता है एवं अंतिम छोर तक पानी नहीं जाता इसके जिम्मेदार ठेकेदार पर क्या कार्यवाही की गई एवं नहर पक्की कब तक कर दिया जायेगा?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जिला डिण्डौरी में दनदना नदी पर निर्मित कुकर्रा जलाशय से रूपांकित सिंचाई क्षमता के विरूद्ध 132 हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई हो रही है। योजना के निर्माण में पाई गई कमियों के लिये संबंधित अधिकारियों एवं कर्मचारियों पर पूर्व में दण्डात्मक कार्यवाही की जा चुकी है। (ख) उत्तरांश (क) अनुसार संबंधितों के विरुद्ध दण्डात्मक कार्यवाही की जाना प्रतिवेदित है। (ग) देवरगढ़ (दनदना) जलाशय की नहरें अधिकतम कच्ची एवं कंटूर पर निर्मित होने से नहर रिसाव एवं खेतों में जल भराव समस्या निर्मित होना प्रतिवेदित है। मुख्य नहर अधिकतम कंटूर पर निर्मित होने के कारण वर्षाकाल में वर्षा के दौरान नहर में पानी के साथ पहाड़ियों से अतिरिक्त सिल्ट के जमाव अर्थात जमा हो जाने के कारण अंतिम छोर तक पानी नहीं पहुंच पाना प्रतिवेदित है। अधीक्षण यंत्री जल संसाधन मण्डल जबलपुर के निरीक्षण दिनांक 13/11/2024 द्वारा दिये गये निर्देशानुसार नहर में सी.सी. लाईनिंग, कटिंग रीच में क्लोज डक्ट के निर्माण हेतु प्रस्ताव मैदानी स्तर पर तैयार किये जाने की कार्यवाही प्रचलन में होना प्रतिवेदित है। शासन स्तर पर प्रस्ताव प्राप्त होने पर परीक्षणोपरांत स्वीकृति हेतु निर्णय लिया जा सकेगा। निश्िचत समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
मुख्यमंत्री संजीवनी क्लीनिक का नये भवन में संचालन
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
7. ( क्र. 239 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या नगर निगम वार्ड क्र. 74 कुदवारी, 75 बघेली, 77 सुहागी, 78 बिलपुरा में मुख्यमंत्री संजीवनी क्लीनिक के नये भवन प्रश्न दिनांक से विगत 6 माह पूर्व से बनकर तैयार हैं? (ख) यदि हाँ, तो नये भवनों में क्लीनिक क्यों नहीं प्रारंभ किये गये? (ग) प्रश्नांश (क) के अंतर्गत क्लीनिक कब से प्रारंभ किये जायेंगे? (घ) क्या वर्तमान स्थिति में भवनों की सुरक्षा हेतु व्यवस्था की गई है? यदि हाँ, तो क्या व्यवस्था है?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) नगर निगम वार्ड क्रमांक 75 बघेली एवं 78 बिलपुरा में मुख्यमंत्री संजीवनी क्लीनिक नगर निगम जबलपुर द्वारा निर्माण पूर्ण होने के बाद लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग को हस्तांतरण प्राप्त हुआ है परंतु वार्ड क्रमांक 74 कुदवारी एवं 77 सुहागी में लघु निर्माण कार्य अपूर्ण है। (ख) उत्तरांश (क) के अनुक्रम में विभाग को हस्तांतरित भवन वार्ड क्रमांक 75 बघेली क्रियाशील की गयी है। वार्ड क्रमांक 78 बिलपुरा मुख्यमंत्री संजीवनी क्लीनिक में चिकित्सक की पदस्थापना आदेश क्रमांक/ एन.एच.एम./एच.आर./सं.नि.-एम.ओ./2024-25/20865 भोपाल, दिनांक 12.11.2024 की गयी थी परंतु चिकित्सक द्वारा ज्वाईन नहीं किये जाने के कारण क्लीनिक प्रारंभ नहीं की जा सकी है। चिकित्सक की उक्त स्थल पर उपलब्धता के आधार पर क्लीनिक प्रांरभ की जा सकती है। (ग) राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन में चिकित्सकों की भर्ती प्रक्रिया सतत् है, अत: संस्था को क्रियाशील करने की निश्चित दिनांक बताया जाना संभव नहीं है। (घ) जी हाँ। वार्ड क्रमांक 75 बघेली एवं 78 बिलपुरा में संचालित मुख्यमंत्री संजीवनी क्लीनिक की देख-रेख सुरक्षा स्वास्थ्य विभाग द्वारा तथा वार्ड क्र. 74 कुदवारी, 77 सुहागी की सुरक्षा व्यवस्था नगर निगम जबलपुर द्वारा की जा रही है।
राज्य पुरातत्व विभाग द्वारा संरक्षित मंदिर/धरोहरें
[संस्कृति]
8. ( क्र. 240 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राज्य पुरातत्व विभाग द्वारा संरक्षित धरोहरों/मंदिरों के जीर्णोद्धार के लिये कार्ययोजना बनाई गई है? (ख) क्या ग्राम मटियाकुई में स्थित प्राचीन मंदिर/मान्यूमेंट रख-रखाव के अभाव में झुकता जा रहा है एवं बरसात में पानी का रिसाव होता है? (ग) यदि हाँ, तो मंदिर की सुरक्षा हेतु क्या कार्यवाही की जावेगी?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। (ख) ग्राम मटियाकुई स्थित सरंक्षित स्मारक राम मंदिर का विगत दो वर्ष पूर्व 2022-23 में अनुरक्षण कार्य कराया गया था। वर्तमान में स्मारक के गिरने की संभावना नहीं है। (ग) उत्तरांश (ख) अनुसार।
भोपाल में ग्राम बकानिया के अधूरे शासकीय विद्यालय
[स्कूल शिक्षा]
9. ( क्र. 247 ) श्री रामेश्वर शर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) हुजूर विधानसभा के जनपद पंचायत फंदा के ग्राम पंचायत बकानिया में 2018 से बन रहे हाई स्कूल के भवन का कार्य कब तक पूर्ण होगा? (ख) उक्त भवन के निर्माण पर निर्माण एजेंसी को कुल कितना भुगतान किया गया? (ग) दोषी अधिकारी कर्मचारियों पर कोई कार्यवाही की जाएगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत प्रश्नाधीन कार्य बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ख) प्रश्नाधीन कार्य हेतु प्रारंभिक रूप सें राशि रूपये 100.00 लाख का आवंटन निर्माण एजेन्सी को जारी किया गया। (ग) शेषांश उद्भूत नहीं होता।
भोपाल के वीआईपी रोड एवं खानूगांव में शासकीय भूमि
[राजस्व]
10. ( क्र. 249 ) श्री रामेश्वर शर्मा : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भोपाल के राजाभोज सेतु से वीआईपी रोड लालघाटी तक रोड के दोनों ओर कितनी शासकीय भूमि है? खसरा सहित विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराएं। (ख) भोपाल के खानूगांव में कुल कितनी शासकीय भूमि है? खसरा सहित जानकारी उपलब्ध कराएं।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) भोपाल के राजाभोज सेतु से वीआईपी रोड लालघाटी तक की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट -अ अनुसार। (ख) भोपाल के खानूगांव की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-ब अनुसार।
शासकीय स्कूलों में कार्यरत अतिथि शिक्षिकों के नियुक्ति नियम
[स्कूल शिक्षा]
11. ( क्र. 441 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासकीय स्कूलों में अतिथि शिक्षक को नियुक्त करने के क्या-क्या नियम व प्रावधान है। विस्तृत जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) क्या अतिथि शिक्षक शासकीय स्कूल में कार्य करते हुए राजनैतिक पद व राजनैतिक कार्यक्रमों में सम्मिलित हो सकते है? (ग) यदि हाँ, तो, कारण स्पष्ट करें। (घ) यदि नहीं, तो ऐसा कृत्य करने वाले अथिति शिक्षक पर क्या कार्यवाही की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) शासकीय स्कूलों में अतिथि शिक्षक को नियुक्ति करने का नहीं, अपितु शिक्षकों के रिक्त पदों के विरूद्ध अतिथि शिक्षकों को आमंत्रित करने का प्रावधान है। नियम व प्रावधान संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। (ग) उत्तरांश ''ख'' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) शिकायत प्राप्त होने पर जाच उपरांत गुण-दोष के आधार पर यथोचित कार्यवाही की जाती है।
बीना नदी परियोजनांतर्गत बांध निर्माण की स्थिति
[जल संसाधन]
12. ( क्र. 490 ) श्री भूपेन्द्र सिंह : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सागर जिले में बीना नदी परियोजना अन्तर्गत हनौता बांध एवं चकरपुर बांध निर्माण कार्य कब तक पूर्ण होना था? वर्तमान में दोनों बांधों के निर्माण की स्थिति क्या है? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार हनौता बांध परियोजना से कितने ग्रामों की, कितने हेक्टेयर कृषि भूमि को सिंचाई हेतु लाभ मिलेगा और चकरपुर बांध से खुरई विधानसभा क्षेत्र के कितने ग्रामों को हर-घर-नल पेयजल योजना का लाभ प्राप्त होगा? (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार किसानों को सिंचाई सुविधा का लाभ एवं ग्रामों में पेयजल योजना का लाभ कब तक प्राप्त हो सकेगा? उपरोक्तानुसार योजना की जानकारी का विस्तृत ब्यौरा दें?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) हनौता बांध के निर्माण कार्य पूर्ण होने की समयावधि 26.02.2023 तक थी एवं माह-जून 2026 तक समय वृद्धि प्रदान की गई है तथा चकरपुर बांध के निर्माण कार्य की समयावधि 28.02.2025 तक थी। वर्तमान में हनौता बांध का निर्माण कार्य 85 प्रतिशत पूर्ण हो चुका है तथा चकरपुर बांध का निर्माण कार्य 100 प्रतिशत पूर्ण होना प्रतिवेदित है। (ख) हनौता परियोजना से 172 ग्रामों की 40,000 हेक्टेयर कृषि भूमि को सिंचाई हेतु लाभ मिलेगा। नल-जल योजना जल संसाधन विभाग द्वारा क्रियान्वित नहीं कराया जाता है। अत: प्रश्नांश में चाही गई जानकारी इस विभाग द्वारा देना संभव नहीं है। (ग) हनौता बांध परियोजना से किसानों को सिंचाई सुविधा का लाभ वर्ष जून-2026 से प्राप्त होना संभावित है। उत्तरांश (ख) अनुसार जानकारी देना संभव नहीं है।
गौशाला की भूमि का डायवर्सन
[राजस्व]
13. ( क्र. 635 ) डॉ. चिंतामणि मालवीय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या गौशाला की भूमि के डायवर्सन के लिए अनुविभागीय अधिकारी को सशक्त किया गया है? (ख) आनलाइन प्रक्रिया से कितने समय में गौशाला का डायवर्सन अनुविभागीय अधिकारी के पोर्टल से किया जाना सुनिश्चित किया गया है। (ग) रतलाम, उज्जैन एवं देवास जिले में समय-सीमा से बाहर अधिकतम कितने समय में गौशाला के डायवर्सन किए गए तथा निर्धारित समय के बाद अनुविभागीय अधिकारी द्वारा गौशाला के कितने प्रकरणों का निपटारा किया गया। (घ) समयावधि, तीन माह, छ: माह, नौ माह तथा नौ माह से अधिक के प्रारूप में दर्शाई जाकर उपलब्ध कराएं।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। (ख) डायर्वसन की प्रक्रिया अधिकतम 15 दिवस में पोर्टल से पूर्ण हो जाती है। (ग) एवं (घ) जानकारी निरंक है।
अतिथि शिक्षक की ज्वाइनिंग
[स्कूल शिक्षा]
14. ( क्र. 695 ) श्री देवेन्द्र रामनारायन सखवार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वर्ष 2024-25 में शासन के नियमानुसार ऑनलाइन माध्यम से शासकीय हाईस्कूल जैतपुरा गुढ़ा तहसील मिहोना जिला भिण्ड में अतिथि शिक्षक ss-3 लेब के रिक्त पद पर श्री दिपेन्द्र सिंह पुत्र श्री राजेश सिंह को ऑनलाइन के माध्यम से नियुक्ति पत्र जारी किया गया था? यदि हाँ, तो संबंधित शाला प्रभारी द्वारा रिफ्रेन्स कोड जारी न कर ज्वाइन न कराने के क्या कारण हैं? (ख) क्या संबंधित अतिथि शिक्षक को ज्वाइन कराने के लिए खण्ड शिक्षा -अधिकारी रौन जिला भिण्ड द्वारा दिनांक 14.10.2024 को एवं जिला शिक्षा अधिकारी भिण्ड द्वारा 25.10.2024, 06.11.2024 के द्वारा संबंधित अतिथि शिक्षक को ज्वाइन कराने के लिए प्राचार्य, शासकीय हाईस्कूल जैतपुरा गुढ़ा को निर्देश देने के बाद भी प्राचार्य द्वारा अतिथि शिक्षक को आज दिनांक तक ज्वाइन नहीं कराया गया है? यदि हाँ, तो क्यों? (ग) क्या कलेक्टर भिण्ड द्वारा उक्त प्रकरण की कराई गई जांच में प्राचार्य का दोष सिद्ध हुआ है? यदि हाँ, तो प्राचार्य के विरूद्ध अभी तक कार्यवाही नहीं करने का क्या कारण है तथा कब तक दंडित किया जाएगा? (घ) क्या लोक शिक्षण संचालनालय द्वारा 20 जनवरी 2025 को माननीय उच्च न्यायालय ग्वालियर द्वारा पारित आदेशानुसार अतिथि शिक्षक एसएस-3 लेब के पद पर ज्वाइन कराकर तीन दिवस में पालन प्रतिवेदन भेजने के निर्देश प्राचार्य शासकीय हाईस्कूल जैतपुरा गुढ़ा को दिए गए थे? यदि हाँ, तो माननीय न्यायालय के निर्देश के बाद भी अतिथि शिक्षक को ज्वाइन क्यों नहीं कराया जा रहा है एवं कब तक ज्वाइन कराया जाएगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी नहीं। अतिथि शिक्षकों को आनॅलाईन नियुक्ति पत्र जारी किये जाने का कोई प्रावधान नहीं है। नियमानुसार अतिथि शिक्षक के उपलब्ध पैनल से रिक्त पद के विरूद्ध स्कोर कार्ड की मैरिट आधार पर, अतिथि शिक्षक को आंमत्रित किये जाने का प्रावधान है। प्रकरण में प्रभारी प्राचार्य द्वारा अवगत कराया गया है कि अतिथि शिक्षक अध्यापन कार्य की पुष्टि न होने से संबंधित आवेदक को रिफरेंस कोड जारी नहीं किया गया, न ही ऑनलाईन ज्वाइन कराया गया। (ख) जी हाँ। शाला प्रभारी द्वारा ऑनलाईन ज्वाइन नहीं कराया गया। इस कारण प्रभारी प्राचार्य के विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही हेतु कारण बताओं सूचना पत्र जारी किया गया है। (ग) जी हाँ। उत्तरांश ''ख'' अनुसार। शेषांश प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी हाँ। सत्र 2024-25 की अतिथि शिक्षक ज्वाइनिंग प्रक्रिया समाप्त हो चुकी है। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है।
तीसरी संतान की जानकारी छिपाकर नौकरी की जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
15. ( क्र. 696 ) श्री देवेन्द्र रामनारायन सखवार : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता के प्रश्न 3354 दिनांक 18.07.2024 के उत्तर के प्रश्नांश (ख) में नियुक्ति के समय आवेदक द्वारा प्रदान किए गए अभिलेखों के आधार पर सशर्त नियुक्ति प्रदान की जाती है एवं संबंधित के विरूद्ध जांच प्रचलन में है की जानकारी दी गई थी? (ख) यदि हाँ, तो उक्त प्रश्नांश के परिप्रेक्ष्य में क्या जांच पूर्ण कर ली गई है एवं जांच उपरांत संबंधित के विरूद्ध क्या कार्यवाही की गई? जांच प्रतिवेदन की प्रति उपलब्ध कराएं? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) क्या वरिष्ठ संयुक्त संचालक (शि.) संचालनालय स्वास्थ्य सेवाएं, म.प्र. द्वारा पत्र क्र. 4/शिका./सेल 4/भिण्ड-ग्वालियर/2024/2230 भोपाल, दिनांक 19.12.2024 से डॉ. विजय कुमार शर्मा, चिकित्सा अधिकारी, सिविल अस्पताल लहार जिला भिण्ड के विरूद्ध विभागीय जांच हेतु आरोप पत्र जारी किया गया है? यदि हाँ, तो क्या विभागीय जांच प्रारंभ हो गई है? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) क्या डॉ. शर्मा द्वारा 26 जनवरी 2001 या उसके पश्चात 2015 में नियुक्ति के समय अपनी तीसरी संतान की जानकारी छुपाए जाने के मामला विभाग/शासन के संज्ञान में होने के बावजूद भी 09 वर्ष अधिक समयावधि 3 वर्ष से अधिक समय व्यतीत होने के बाद भी डॉ. शर्मा को जांच के नाम पर बचाये जाने का प्रयास किया जा रहा है? यदि नहीं, तो डॉ. शर्मा के विरूद्ध जांच पूर्ण कर उन्हें कब तक सेवा से पृथक किया जाएगा? (ड.) क्या सिविल अस्पताल लहार में डॉ. विजय कुमार शर्मा अन्य चिकित्सकों से कनिष्ठ होने एवं उनके विरूद्ध विभागीय जांच लंबित होने के उपरांत भी वरिष्ठ चिकित्सकों की वरीयता को दरकिनार कर नियम विरुद्ध ब्लॉक मेडिकल ऑफिसर लहार बनाया गया? यदि हाँ, तो क्यों एवं इसके लिए कौन-कौन जिम्मेदार हैं? क्या इसकी जांच कराकर दोषी अधिकारियों के विरूद्ध कार्यवाही की जाएगी एवं डॉ. विजय कुमार शर्मा को बी.एम.ओ. के पद से हटाया जाएगा? यदि नहीं, तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख) प्रकरण में डॉ. विजय कुमार शर्मा, चिकित्सा अधिकारी, सिविल अस्पताल लहार जिला भिण्ड के विरूद्ध संचालनालय द्वारा दिनांक 04.03.2025 को प्रकरण में जांच संस्थित की गई है। अतः शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। जी हाँ। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी नहीं। उत्तरांश (ख) अनुसार डॉ. विजय कुमार शर्मा के विरूद्ध विभागीय जांच संस्थित की गई है। विभागीय जांच रिपोर्ट उपरांत कार्यवाही नियमानुसार किए जाने का प्रावधान है। (ड.) कलेक्टर जिला भिण्ड के आदेश दिनांक 10.01.2024 के द्वारा चिकित्सा अधिकारियों की वरीयता को दृष्टिगत रखते हुए खण्ड चिकित्सा अधिकारी लहार का प्रभार आगामी अन्य आदेश तक सौंपा गया था। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय में व्याप्त अनियमितताएं
[स्कूल शिक्षा]
16. ( क्र. 718 ) श्री यादवेन्द्र सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. शासन सामान्य प्रशासन विभाग के ऐसे नियम है कि विधायक सांसदों के पत्रों पर कार्यवाही करते हुए पत्राचार करने वाले जनप्रतिनिधि को अवगत कराना आवश्यक है? (ख) टीकमगढ़ नगर में शिक्षक सदन निर्माण एवं नियंत्रण समिति के गठन बावत प्रश्नकर्ता द्वारा अनेकों पत्र लिखे गये किन्तु जिला शिक्षा अधिकारी टीकमगढ़ द्वारा कोई कार्यवाही नहीं की गई और शिक्षक सदन निर्माण समिति को निष्क्रिय कर दिया। यदि नहीं, तो किये गये पत्राचार की प्रतियां उपलब्ध करावें? (ग) जिला शिक्षा अधिकारी टीकमगढ़ श्री आई.एल. अठया द्वारा किये जा रहे नियम विरूद्ध कार्यों की जांच कब तक की जावेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) प्रश्नकर्ता द्वारा टीकमगढ़ नगर में शिक्षक सदन निर्माण एवं नियंत्रण समिति के गठन बाबत् पत्र नहीं लिखे गये, अपितु शिक्षक सदन निर्माण एवं नियंत्रण समिति की बैठक बुलाये जाने हेतु पत्र लिखे गये है। शिक्षक सदन निर्माण एवं नियंत्रण समिति वर्तमान में भी अस्तित्व में है। माननीय सदस्य द्वारा लिखे गये पत्र पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। (ग) श्री आई.एल. आठिया, जिला शिक्षा अधिकारी टीकमगढ़ की जांच संयुक्त संचालक, लोक शिक्षण, सागर संभाग सागर के आदेश क्रमांक/सर्तकता/टीकमगढ़/2024/6790 दिनांक 30.09.2024 द्वारा जांच समिति गठित कर जांच संस्थित की गई है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
केंट विधानसभा अंतर्गत सीएम राइज स्कूल
[स्कूल शिक्षा]
17. ( क्र. 727 ) श्री अशोक ईश्वरदास रोहाणी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) केंट विधानसभा अंतर्गत वर्तमान में कुल कितने सीएम राइज स्कूल स्वीकृत हुए हैं, जानकारी दें? (ख) स्वीकृत सीएम राइज स्कूलों के निर्माण की क्या प्रगति हैं, जानकारी दें? (ग) इनका निर्माण कार्य कब तक प्रारंभ किया जायेगा, समय-सीमा बताएं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) केंट विधानसभा अंतर्गत 01 सीएम राइज विद्यालय शासकीय कन्या उच्चतर माध्यमिक विद्यालय करोंदी ग्राम स्वीकृत है। (ख) प्रशासकीय स्वीकृति की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है, शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
अनुविभागीय अधिकारी के स्थाई पद की स्वीकृति
[राजस्व]
18. ( क्र. 748 ) डॉ. तेजबहादुर सिंह चौहान : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नागदा नगर में क्या जिलाधीश महोदय द्वारा दिए गये अतिरिक्त कार्य के अनुरूप ही अनुविभागीय अधिकारी द्वारा कार्य किया जाता है। क्या नागदा शहर में अनुविभागीय अधिकारी का स्थाई पद स्वीकृत होकर क्या गजट नोटिफिकेशन हो गया है? (ख) यदि नहीं, तो उज्जैन जिले के नागदा जो की जिले का सबसे बड़ा शहर है साथ ही लगभग 1 लाख से अधिक की आबादी वाला शहर होकर एक प्रसिद्ध औद्योगिक क्षेत्र भी है और तहसील मुख्यालय होने के बाद भी अब तक यहां एक अनुविभागीय अधिकारी के स्थाई पद की स्वीकृति क्यों नहीं की गयी? (ग) भविष्य में नागदा के लिए कब तक शासन द्वारा आवश्कतानुसार अनुविभागीय अधिकारी सहित तहसीलदार, नायब तहसीलदार के पदों को स्वीकृत कर दिया जाएगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। नागदा नगर में अनुविभागीय अधिकारी द्वारा स्थाई रूप से कार्य किया जा रहा है। विभागीय आदेश दिनांक 08/05/2013 द्वारा नागदा को राजस्व उपखण्ड बनाया गया है। आदेश की प्रति संलंग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश ''क'' के परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) नागदा में अनुविभागीय अधिकारी द्वारा स्थाई रूप से कार्य किया जा रहा है। नागदा तहसील के लिये तहसीलदार एवं नायब तहसीलदार के पद स्वीकृत है।
पंधाना विधानसभा में सीएम राइज स्कूल
[स्कूल शिक्षा]
19. ( क्र. 788 ) श्रीमती छाया गोविन्द मोरे : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पंधाना विधानसभा क्षेत्र में कुल कितने और कहाँ सी.एम. राइज स्कूल संचालित है? स्कूलों को प्राप्त समस्त सुविधाओं की जानकारी देवें। (ख) विधानसभा क्षेत्र में कहाँ पर सी.एम. राइज स्कूल प्रस्तावित है और कब तक बन कर तैयार हो जायेगा? (ग) इस वित्त वर्ष में पंधाना विधानसभा में संचालित सी.एम. राइज विद्यालय में कितनी बसें उपलब्ध कराई गई थीं? उसमें से कितनी बसें प्रारंभ हुई एवं शेष बसें जो उपलब्ध नहीं हो सकी जिससे विधार्थियों को काफ़ी समस्याओं का सामना करना पड़ा? इसमें दोषी अधिकारियों/कर्मचारियों तथा ठेकेदार पर क्या कार्यवाही की जाएगी? (घ) वर्तमान में जो सी.एम. राइज विद्यालय निर्माणाधीन हैं, उनकी गुणवत्ता की जांच कब-कब किस अधिकारी द्वारा की गई है? गुणवत्ता की जांच रिपोर्ट तथा गुणवत्ता की जांच करने वाले अधिकारी कर्मचारियों की सूची उपलब्ध कराई जाएं तथा गुणवत्ता में कोई त्रुटि पाई गई हैं क्या और सम्बन्धित ठेकेदार पर क्या कार्यवाही की गई है एवं निर्माण कार्य कब तक पूर्ण होगा? समय-सीमा बताएं।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''एक'' पर है। (ख) विधानसभा क्षेत्र पंधाना अंतर्गत ग्राम बोरगाव बुजुर्ग, कारपुर एवं रूस्तमपुर में सीएम राइज़ विद्यालय प्रस्तावित हैं। सीएम राइज़ विद्यालयों की स्वीकृति बजट की उपलब्धता पर निर्भर है, अतएव निश्िचत समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) कुल 17 बसें। कुल 12 बसें प्रारंभ हुई। शेष बस संचालित नहीं किये जाने के कारण निविदाकार को कारण बताओ सूचना पत्र जारी कर जुर्माना वसूली की कार्यवाही की गई है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "दो" अनुसार है। गुणवत्ता जांच रिपोर्ट पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "तीन"अनुसार है। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''दो'' अनुसार है। एप्को द्वारा नियुक्त वास्तुविद द्वारा समय-समय पर किये गए अवलोकनों में पाई गई त्रुटियों को सुधारने हेतु कार्यस्थल पर निर्देशित जाता है एवं निर्माण एजेंसी को लेख किया जाता है। सीएम राइज स्कूल छैगांवमाखन के भवन पूर्ण होने की सम्भावित तिथि 20.12.2025 एवं सीएम राइज स्कूल पंधाना के भवन पूर्ण होने की सम्भावित तिथि 31.05.2025 है।
विभाग द्वारा संचालित योजनाएं
[मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास]
20. ( क्र. 789 ) श्रीमती छाया गोविन्द मोरे : क्या राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा मत्स्य उत्पादन को बढ़ाने के लिए कौन-कौन सी योजनाएं संचालित है? (ख) आदिवासी बाहुल्य पंधाना विधानसभा क्षेत्र में विभाग के कितने तालाब संचालित है तथा उनमें मछली पालन कौन-कौन की संस्था/समिति द्वारा कब से किया जा रहा है और कब तक किया जाएगा इससे विभाग को प्रति तालाब कितनी आय हो रही हैं वहाँ पर वर्तमान में प्रति तालाब उत्पादन की जानकारी देवें। (ग) पंधाना विधानसभा में प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना अंतर्गत किसानों को लाभ पहुँचाने की कार्य योजना बताएँ।
राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास ( श्री नारायण सिंह पंवार ) : (क) विभाग में मत्स्य उत्पादन को बढ़ाने के लिये संचालित योनजाओं की जानकारी संलग्न परिशिष्ट-अ अनुसार। (ख) आदिवासी बाहुल्य पंधान विधान सभा क्षेत्र में विभाग का कोई तालाब नहीं है। (ग) पंधाना विधानसभा में वर्ष 2024-25 से प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना के तहत कार्य योजना की जानकारी संलग्न परिशिष्ट-ब अनुसार।
प्रधानमंत्री/मुख्यमंत्री कृषक सम्मान योजना
[राजस्व]
21. ( क्र. 806 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) हरदा विधानसभा क्षेत्रांतर्गत कुल कितने किसानों को प्रधानमंत्री/मुख्यमंत्री कृषक सम्मान योजना अंतर्गत प्रोत्साहन राशि प्रदाय की जा रही है? विकासखंण्डवार, ग्रामवार, नाम सहित जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) प्रधानमंत्री/मुख्यमंत्री कृषक सम्मान योजनांतर्गत पात्र किसानों के नाम जोड़ने की क्या कोई योजना प्रचलन में है? (ग) यदि हाँ, तो कब से किसानों के नाम जोड़े जावेंगे? (घ) यदि नहीं, तो इसका कारण स्पष्ट करें। (ड.) प्रधानमंत्री/मुख्यमंत्री कृषक सम्मान योजना अंतर्गत किसानों के नाम जोड़ने के क्या नियम व शर्तें हैं? विस्तृत जानकारी उपलब्ध करावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) हरदा विधानसभा क्षेत्रांतर्गत 27344 कृषकों को प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि एवं मुख्यमंत्री किसान कल्याण योजनान्तर्गत प्रोत्साहन राशि प्रदान की जा रही है। हितग्राहियों की विकासखंडवार, ग्रामवार, नाम सहित जानकारी https://pmkisan.gov.in पर उपलब्ध है। (ख) प्रधानमंत्री किसान कल्याण योजनांतर्गत नाम जोड़ने हेतु कृषक पी.एम. किसान पोर्टल पर कियोस्क के माध्यम से एवं पटवारी के माध्यम से स्वयं पंजीयन हेतु आवेदन कर सकते है। पी.एम. किसान पोर्टल पर पात्र होने जाने के पश्चात कृषक मुख्यमंत्री किसान कल्याण योजना हेतु पात्र हो जाते हैं। (ग) पात्र हितग्राहियों के द्वारा सेल्फ रजिस्ट्रेशन के माध्यम से नाम जोड़ने की प्रक्रिया जारी है। (घ) प्रश्नांश ''ग'' के उत्तर के अनुक्रम प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ङ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
चिकित्सालय अनूपपुर में चिकित्सा सुविधा में सुधार
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
22. ( क्र. 908 ) श्री बिसाहूलाल सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला मुख्यालय अनूपपुर में कितने बिस्तर का चिकित्सालय संचालित हैं तथा यहां कितने चिकित्सक, नर्स, कंपाउण्डर, लैब टेक्नीशियन सहित अन्य कर्मचारियों के पद स्वीकृत हैं तथा उनमें से वर्तमान में कितने-कितने कर्मचारी पदस्थ हैं तथा कितने पद रिक्त हैं? सूचीबद्ध जानकारी उपलब्ध कराएं। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार जिला मुख्यालय अनूपपुर में स्थित चिकित्सा अनूपपुर में मरीजों की चिकित्सा हेतु कौन-कौन सी सुविधाएं उपलब्ध है? जांच हेतु कौन-कौन से यंत्र उपलब्ध हैं तथा उनसे कितने मरीजों को लाभ मिलता है? जानकारी देवें। (ग) क्या जिला चिकित्सालय अनूपपुर में पदस्थ मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी की पदस्थापना नहीं होने से खण्ड चिकित्सा अधिकारी कोतमा को मुख्य चिकित्सा अधिकारी का प्रभार दिया गया है, जो कि अन्य चिकित्सकों की अपेक्षा कनिष्ठ है। जिसे प्रभार देने के कारण जिला चिकित्सालय अनूपपुर में पदस्थ अन्य चिकित्सकों एवं कर्मचारियों में निरंकुशता व्याप्त है? मरीजों की समुचित इलाज नहीं हो पाती, चिकित्सक समय में उपस्थित नहीं होते हैं और यदि उपस्थित भी रहते है तो मात्र औपचारिकतायें निभाई जाती है? जिससे गंभीर मरीजों अन्यत्र रिफर कराना पड़ता हैं, अथवा मरीज चिकित्सा के अभाव में व चिकित्सकों के लापरवाही के कारण चिकित्सालय में ही दम तोड़ देते हैं? चिकित्सालय में कई जनप्रतिनिधियों को चोट लगने, गंभीर बीमार होने पर भी समुचित इलाज नहीं होने से उन्हें बिना छुट्टी कराये ही अन्यत्र इलाज हेतु जाना पड़ता है, चिकित्सालय प्रबंधक उनके प्रति सहिष्णुता के कारण जनप्रतिनिधियों का जिला चिकित्सालय में कोई महत्व नहीं है? निरंकुशता व्याप्त है, मरीज परेशान है? क्या राज्य शासन उच्च स्तरीय टीम गठित कर जांच करायेग? यदि हाँ, तो कब तक और नहीं तो क्यों? (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार जिला चिकित्सालय में साफ-सफाई संतोष पद नहीं भोजन व्यवस्था मीनू के अनुसार मरीजों को नहीं दिया जाता है, दवा वितरण में भी लोकल दवाइयां मरीजों को दी जाती है, नर्सों के द्वारा मरीजों का सही उपचार नहीं किया जाता है, मरीजों एवं उनके परिजनों के साथ अभद्रता किये जाने के मामले अधिकांशत: पाये जाते है, जिससे गरीबों को मजबूर होकर निजी मंहगे चिकित्सालय में जाना पड़ता है? जिसका उच्च स्तरीय दल गठित कराकर शासन जांच कराकर अधिकारियों को मरीजों की उत्तम चिकित्सा किये जाने हेतु क्या मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी की पदस्थापना की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जिला अनुपपूर में 200 बिस्तरीय जिला चिकित्सालय संचालित है। जिला चिकित्सालय अनुपपूर के मानव संसाधन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। जांच हेतु उपलब्ध उपकरणों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। जिला चिकित्सालय अनुपपूर में वर्ष 2024-25 में ओ.पी.डी अंतर्गत कुल 115878 रोगियों तथा आई.पी.डी कुल 24550 रोगियों का उपचार उपलब्ध संसाधनों से किया गया है। (ग) जिला चिकित्सालय अनुपपूर में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी की पदस्थापना नहीं की जाती है अपितु जिला चिकित्सालय में सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक की पदस्थापना की जाती है। जी हां, जिला अनुपपूर में खण्ड चिकित्सा अधिकारी कोतमा को मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी का प्रभार दिया गया है। जिला चिकित्सालय अनुपपूर में अव्यवस्था की शिकायत विभाग को प्राप्त नहीं हुई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी नहीं, जिला चिकित्सालय की साफ-सफाई, भोजन, औषधि वितरण तथा कर्मचारियों द्वारा रोगियों एवं परिजनों से दुर्व्यव्यहार किये जाने की शिकायत विभाग को प्राप्त नहीं हुई है। शिकायत प्राप्ति पर नियमानुसार कार्यवाही की जाती है अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
निर्माण कार्य की स्वीकृति
[जल संसाधन]
23. ( क्र. 909 ) श्री बिसाहूलाल सिंह : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला अनूपपुर अंतर्गत विधानसभा क्षेत्र 87 अनूपपुर के उपचुनाव 2020 के दौरान पूर्व मुख्यमंत्री जी द्वारा विधानसभा क्षेत्र बाबाकटी सिवनी बलबहरा, सोन मौहरी, जैतहरी, नगदहा, बम्हनी एवं छिल्पा में स्टोरेज वियर एवं बांध का निर्माण कराकर इस क्षेत्र के कृषकों को सिंचाई की सुविधा उपलब्ध कराने हेतु चुनाव घोषणा (आश्वासन) की गई थी तथा संसाधन विभाग को लगातार पत्राचार किया जा रहा है। किन्तु अभी तक उक्त सिंचाई के परियोजनाएं स्वीकृत नहीं हो पाने के पीछे क्या कारण है? जानकारी उपलब्ध करावें? (ख) क्या विगत विधानसभा सत्र में प्रश्नकर्ता द्वारा बजट सत्र 2023-2024 में विधानसभा तारांकित प्रश्न क्र. 2213 दिनांक 10.07.2024 एवं सितम्बर 2024-25 के विधानसभा सत्र माह 2024 में ध्यानाकर्षण के माध्यम से पूछे गये प्रश्न में अतिशीघ्र कार्य स्वीकृत कराये जाने का आश्वासन दिया गया था किन्तु अभी तक कार्य का सर्वे ही पूर्ण नहीं हो पाने के पीछे क्या कारण हैं? (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार विधानसभा क्षेत्र अनूपपुर के बहु प्रतीक्षित बांधों के निर्माण कार्य स्वीकृत किये जाने के विलंब होने के क्या कारण हैं? अब तक कार्य स्वीकृत नहीं हो पाने के दोषी कौन है कब विभाग विशेष संज्ञान में लेकर इसी सत्र में उक्त सिंचाई परियोजनाओं की स्वीकृति प्रदान करेगी? यदि हाँ, तो कब तक और नहीं तो क्यों? (घ) प्रश्नांश (क) (ख) (ग) एवं (घ) अनुसार विधानसभा क्षेत्र के लंबित सिंचाई परियोजनाओं की स्वीकृति न हो पालने से क्षेत्र के कृषकों के अविश्वास एवं असंतोष व्याप्त है, विभाग के उदासीनता के कारण अभी तक कार्य स्वीकृत नहीं हो पाये जिसे कब तक पूर्ण किया जायेगा?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी नहीं, अपितु प्रश्नांश में उल्लेखित ग्रामों को सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराने माननीय पूर्व मंत्री महोदय द्वारा पत्राचार किया गया है। उल्लेखित योजनाओं की डी.पी.आर. में तकनीकी निराकरण प्रक्रियाधीन हैं। शेष प्रश्नांश का प्रश्न नहीं। विवरण संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं, अपितु उल्लेखित कार्यों के सर्वे कार्य पूर्ण किये जा चुके है। (ग) प्रश्नांश ''क'' में उल्लेखित कार्यों की प्रशासकीय स्वीकृति प्राप्त किये जाने हेतु डी.पी.आर. तैयार करने की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। प्रशासकीय स्वीकृति हेतु प्रकरण विभागीय तकनीकी एवं वित्तीय मापदण्ड के अनुरूप पाये जाने पर ही स्वीकृति संभव होती है। अतः विलम्ब का प्रश्न नहीं एवं न ही कोई जिम्मेदार है। वर्तमान में समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (घ) जी नहीं, क्षेत्र के स्थानीय कृषकों में असंतोष होना प्रतिवेदित नहीं है।
सिंचाई क्षेत्र में वृद्धि
[जल संसाधन]
24. ( क्र. 924 ) श्री घनश्याम चन्द्रवंशी : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र में वर्ष 2003 के पहले कितना रकबा सिंचित था तथा वर्ष 2003 के बाद कहां-कहां सिंचित क्षेत्र का विस्तार किया गया है? (ख) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र में वर्तमान में कितना रकबा सिंचित है, जानकारी देवें? विभाग द्वारा क्षेत्र में सिंचाई सुविधा बढ़ाने हेतु क्या योजना बनाई गई है तथा कब तक उक्त योजना को क्रियान्वित कर दिया जाएगा? (ग) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र में हर खेत में पानी पहुँचाने कि क्या योजना है और ये कब तक पूर्ण होगी? (घ) क्या कालापीपल विधानसभा क्षेत्र से होकर गुजरने वाली नदियों को नदी जोड़ों अभियान में जोड़ा जाएगा? यदि हाँ, तो किन-किन नदियों को कब तक जोड़ा जाएगा?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत- 1. जल संसाधन विभाग द्वारा वर्ष 2003 के पहले 2007 हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई हेतु जल उपलब्ध कराया गया था। वर्ष 2003 के बाद विभाग द्वारा 5156 हेक्टेयर क्षेत्र का विस्तार किया जाना प्रतिवेदित है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। 2. नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण के अंतर्गत जानकारी निरंक है। (ख) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत- 1. वर्तमान में 2255.918 हेक्टेयर रकबा असिंचित है, जल संसाधन विभाग के अंतर्गत कालापीपल क्षेत्र में सिंचाई सुविधा बढ़ाने हेतु 6 लघु सिंचाई योजनाओं की साध्यता प्रदान की गई है। इन योजनाओं का विस्तृत सर्वेक्षण कार्य एवं डी.पी.आर. तैयार करने की कार्यवाही मैदानी स्तर पर प्रक्रियाधीन होना प्रतिवेदित है। इन योजनाओं की स्वीकृति उपरांत जलाशयों में उपलब्ध जल के अनुसार सिंचाई प्रस्तावित है। इसके अतिरिक्त वर्तमान में हर खेत को पानी पहुंचाने हेतु योजना नहीं है। निश्िचत समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। योजनाओं की प्रशासकीय स्वीकृति उपरांत क्रियान्वयन किया जा सकेगा। जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। 2. नर्मदा घाटी विकास प्राधिकरण के अंतर्गत नर्मदा पार्वती लिंक परियोजना फेस 01 एवं 02 से कालापीपल विधानसभा क्षेत्र के 01 ग्राम का 1459 हेक्टेयर एवं नर्मदा पार्वती लिंक परियोजना फेस 03 एवं 04 के 62 ग्रामों की 36523 हेक्टेयर सिंचित क्षेत्र कुल 37982 हेक्टेयर सिंचित क्षेत्र का विस्तार किया जाना प्रगतिरत है एवं दिसम्बर 2026 तक क्रियान्वयन किया जाना प्रतिवेदित है। (ग) उत्तरांश (ख) अनुसार। (घ) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र से होकर गुजरने वाली नदियों को नदी जोड़ों अभियान में जोड़े जाने हेतु जल संसाधन विभाग के अंतर्गत वर्तमान में कोई प्रस्ताव प्रचलन में नहीं है।
मदरसों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
25. ( क्र. 926 ) श्री घनश्याम चन्द्रवंशी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश में 2003 से पूर्व कितने शासकीय मान्यता प्राप्त मदरसे में वर्तमान में कितने शासकीय मान्यता प्राप्त मदरसे है? (ख) मध्यप्रदेश में मदरसों को मान्यता किन नियमों के यहीं दी जाती है? क्या मान्यता प्राप्त मदरसों कि समिति में गैर अल्पसंख्यक सदस्य भी होते या हो सकते हैं? (ग) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र में कितने मदरसे संचालित हैं? इनमें कितने मान्यता प्राप्त हैं तथा कितने गैर मान्यता प्राप्त हैं तथा वह कहां-कहां संचालित हैं तथा उनमें कितने बच्चे किन-किन विषयों की शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं? (घ) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र में संचालित मदरसों का कब-कब निरीक्षण विभाग द्वारा किया गया तथा उनमें क्या-क्या कमियां पाई गईं तथा कितने मदरसे निर्धारित मापदंडों का पालन नहीं कर रहे हैं तथा उन पर क्या कार्यवाही कि गई है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) मध्यप्रदेश में 2003 से पूर्व मान्यता प्राप्त मदरसे 2845 थे। वर्तमान में यू-डाईस डेटा अनुसार वर्ष 2023-2024 में 1260 मदरसे है। (ख) मध्यप्रदेश मदरसा बोर्ड अधिनियम 1998 में वर्णित धारा 8-2 (क) के तहत मदरसों की मान्यता हेतु जिले के जिला शिक्षा अधिकारी से मदरसों का निरीक्षण कराकर अभिमत/अनुशंसा सहित प्रतिवेदन प्राप्त किया जाता है। प्रतिवेदन के आधार पर प्रकरण का परीक्षण कर मदरसों को मान्यता जारी की जाती है। मान्यता प्राप्त मदरसों की समिति में सदस्यों की अर्हता संबंधी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-01 अनुसार। (ग) विधानसभा क्षेत्र कालापीपल में 03 शासकीय मान्यता प्राप्त मदरसे संचालित है एवं मान्यता प्राप्त मदरसों में:- (1) मदरसा क्र. राजीव मेमोरियल कान्वेन्ट रिछड़ी कक्षा 1 से 5 छात्र संख्या 58 है। (2) मदरसा राजीव मेमोरियल कान्वेन्ट बकायन कक्षा 1 से 5 छात्र संख्या 93 है। (3) मदरसा अब्दुल हमीद मेमोरियल खरदौन खुर्द कक्षा 1 से 8 छात्र संख्या 110 है। उपर्युक्त इन सभी में म.प्र. मदरसा बोर्ड के अधीकृत पाठ्यक्रम के तहत दीनी तालिम के साथ आधुनिक विषय यथा गणित, विज्ञान, सामाजिक विज्ञान एवं भाषा का अध्ययन कराया जाता है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट- 02 अनुसार है। विधानसभा क्षेत्र कालापीपल में गैर मान्यता प्राप्त मदरसों का संचालन स्थानीय स्तर पर रहवासियों द्वारा किये जाने के फलस्वरूप स्कूल शिक्षा विभाग का उक्त मदरसों का कोई प्रशासकीय नियंत्रण नहीं होने से गैर मान्यता प्राप्त मदरसों की जानकारी कार्यालयीन अभिलेख में संधारित होकर उपलब्ध नहीं है। (घ) कालापीपल विधानसभा के संचालित मदरसों का निरीक्षण जिला स्तर से गठित समिति के द्वारा 04 सितम्बर एवं 05 सितम्बर 2024 को किया गया। सभी मदरसे म.प्र. मदरसा बोर्ड के द्वारा निर्धारित मापदण्डों का पालन कर रहे है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अधिकारियों/कर्मचारियों का स्थानांतरण एवं अनियमितताओं की जांच
[परिवहन]
26. ( क्र. 959 ) श्री अभय मिश्रा : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा तारांकित प्रश्न क्रमांक 520 दिनांक 18.12.2024 के उत्तर में क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय में स्वीकृत पद एवं पदस्थापना के संबंध में जानकारी दी गई तदानुसार क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी का पद रिक्त होने एवं सहायक क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी को प्रभार देकर वर्ष (29.08.2018) से कार्य लिये जाने की जानकारी दी गई अन्य कर्मचारियों की पदस्थापना अवधि भी चार वर्षों से अधिक बतायी गई। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी की पदस्थापना बाबत् कब-कब कौन-कौन सी कार्यवाही की गई की? प्रति देते हुये बतायें। अगर नहीं की गई तो क्यों? सहायक परिवहन अधिकारी को वर्ष 2018 से प्रभार देकर कार्य लिये जा रहे है, क्यों जबकि जिले के अधिकारियों के स्थानांतरण बाबत् तीन वर्षों में शासन के निर्देश है लेकिन प्रभार देकर तीन वर्षों से ज्यादा कार्य लिये जाने के क्या कारण है? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार तीन वर्ष से ज्यादा अवधि से एक ही पद व जिले में पदस्थ कर्मचारियों के स्थानांतरण बाबत् जारी निर्देशों के बाद भी स्थानांतरण नहीं किये गये, क्यों जबकि तीन वर्ष से ज्यादा अवधि से पदस्थ अधिकारियों/कर्मचारियों के स्थानांतरण बाबत् सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा निर्देश समय-समय पर जारी किये गये, स्थानांतरण बाबत् क्या निर्देश देंगे? अगर नहीं तो क्यों? (घ) प्रश्नांश (क) के अधिकारी के पदस्थापना के दौरान अवैधानिक तरीके से बिना परमिट पर वाहनों के चलने फिटनेस के नाम पर वसूली कर कन्डम वाहनों को चलने हेतु अनुमति देने व मनमानी वसूली की शिकायतें प्राप्त हुई। इन अनियमितताओं के जांच बाबत् क्या निर्देश देंगे? इनके द्वारा वाहनों पर पदस्थगी के दौरान की गई कार्यवाही का विवरण, वसूली गई राशि की जानकारी देवें। (ड.) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) में उल्लेखित अधिकारियों/कर्मचारियों के स्थानांतरण बाबत् क्या निर्देश देंगे? अगर नहीं तो क्यों एवं प्रश्नांश (घ) अनुसार की गई अनियमितताओं की जांच उच्च स्तरीय समिति बनाकर कराये जाने बाबत् देंगे तो बतावें। अगर नहीं तो क्यों?
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) पूर्व तारांकित प्रश्न क्रमांक 520 रीवा व मऊगंज जिले के क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय में अधिकारियों/कर्मचारियों के स्वीकृत पद एवं पदस्थापना के संबंध में था। साथ ही 03 वर्षों से ज्यादा अवधि से अधिक पदस्थापना पर इनके स्थानांतरण बाबत् शासन के क्या निर्देश हैं, पूछा गया था। समुचित उत्तर तत्समय दिया गया है जिसके अनुसार क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, रीवा के पद पर सहायक क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी की पदस्थापना दिनांक 29.08.2018 से है तथा उक्त कार्यालय में पदस्थ अन्य कर्मचारियों में से 06 कर्मचारियों की पदस्थापना अवधि चार वर्षों से अधिक है। (ख) परिवहन विभाग में क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी का पद पदोन्नति द्वारा भरा जाने वाला पद है तथा वर्तमान में क्षेत्रीय परिवहन अधिकारियों के स्वीकृत पदों के विरूद्ध केवल एक क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी पदस्थ है। प्रदेश में पदोन्नति संबंधी प्रकरण माननीय न्यायालय में लंबित होने से अन्य विभागों की तरह परिवहन विभाग में भी पदोन्नति नहीं हो पाने के कारण क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, रीवा के रिक्त पद पर सहायक क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी श्रेणी के अधिकारी को पदस्थ किया गया है। शासन द्वारा समय-समय पर जारी स्थानांतरण नीति के अनुरूप परिवहन विभाग में शासकीय सेवकों के स्थानांतरण किये जाते है। जिसके परिपेक्ष्य में शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता। (ग) विभाग में स्थानांतरण नीति के अनुरूप ही स्थानांतरण किये जाते हैं और कुछ प्रकरणों में बल की कमी एवं प्रशासकीय कारणों से तीन वर्षों से अधिक अवधि हेतु अधिकारी/कर्मचारी पदस्थ रहते हैं। पदस्थापना अवधि की समीक्षा निरंतर की जाती है और यह एक सतत् प्रक्रिया है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय में पदस्थ अधिकारी श्री मनीष त्रिपाठी के विरूद्ध परिवहन आयुक्त कार्यालय ग्वालियर में प्राप्त शिकायतों एवं इन पर की गई विभागीय कार्यवाही का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के पत्रक-अ अनुसार है। संबंधित द्वारा अपनी वर्तमान पदस्थापना के दौरान वाहनों पर की गई कार्यवाही का विवरण, वसूली गई राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के पत्रक-ब अनुसार है। (ड.) उत्तरांश (ग) के परिप्रेक्ष्य में प्रथम प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता। संबंधित के विरूद्ध अनियमिताओं की जांच के संबंध में की गयी विभागीय कार्यवाही का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के पत्रक-अ अनुसार है। उक्त जांच उप परिवहन आयुक्त (शिकायत) के द्वारा की जा रहीं हैं जिसके परिप्रेक्ष्य में उच्च स्तरीय समिति बनाकर जांच कराये जाने की आवश्यकता नहीं होने के कारण शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
चश्मों के क्रम में अनियमितता
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
27. ( क्र. 964 ) श्री अभय मिश्रा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या तारांकित विधानसभा प्रश्न क्रमांक 519 दिनांक 18.12.2024 में दिये गये उत्तर में संलग्न परिशिष्ट अनुसार रीवा जिले में नेत्र चिकित्सकों एवं नेत्र सहायकों द्वारा स्कूली छात्र छात्राओं को परीक्षण कर चश्मा वितरण हेतु व्यय की गई राशि वर्ष 2018 से रीवा संभाग के विभिन्न जिलों की थी चश्मे के क्रय बावत क्रय नियमों का पालन कर किन कंपनी/फर्म से किन माध्यमों एवं प्रक्रियाओं के आधार पर कार्यादेश जारी किये गये का विवरण देवें। (ख) प्रश्नांश (क) के तारतम्य में सीधी जिले में चश्मे की खरीदी में की गई व्यापक अनियमितता की शिकायत पर कार्यवाही हेतु निर्देश जारी किये गये जिसका उल्लेख प्रश्न के उत्तर में नहीं किया गया क्यों जबकि सीधी जिले में व्यापक पैमाने पर हुई अनियमितता पर कार्यवाही प्रस्तावित की गई? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) में की गई अनियमितताओं को लेकर प्रश्नकर्ता सदस्य द्वारा पत्र के माध्यम से मुख्य सचिव म.प्र. शासन भोपाल को पत्र लिखकर कार्यवाही बावत लेख किया गया था पत्र पर कार्यवाही का विवरण देवें इनमें किनको जिम्मेदार मानकर कार्यवाही प्रस्तावित की गई? (घ) प्रश्नांश (क) में दी गई जानकारी में संलग्न परिशिष्ट कूटरचित आधारों पर तैयार किये गये जिनकों प्रश्न के पूर्व चश्मों का वितरण दिखाकर कोरम पूर्ति की गई साथ ही चश्मे के क्रय बावत अपनायी गई विधि प्रक्रिया शासन के क्रय नियमों के अनुसार नहीं थी इस पर कार्यवाही के क्या निर्देश देंगे? अगर नहीं तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी नहीं। तारांकित विधानसभा प्रश्न क्रमांक 519 दिनांक 18.12.2024 में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन द्वारा दिये गये उत्तर में वर्ष 2018 से प्रश्न दिनांक तक रीवा संभाग के जिलों को समस्त मदों में प्राप्त आवंटन एवं व्यय की जानकारी, चाहे अनुसार दी गई थी, जिसमें रीवा जिले में नेत्र चिकित्सकों एवं नेत्र सहायकों द्वारा स्कूली छात्र-छात्राओं को परीक्षण कर चश्मा वितरण हेतु व्यय की गई राशि भी समाहित थी। रीवा संभाग के समस्त जिलों द्वारा जारी कार्यादेश की कंपनी/फर्मवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) उत्तरांश (क) के तारतम्य में जिला सीधी में चश्मे की खरीदी के संबंध में पूर्व में प्रेषित तारांकित प्रश्न क्रमांक 519 सीधी जिले में व्यापक पैमाने पर हुई अनियमितता का उल्लेख नहीं होने के कारण, उत्तर पृच्छा अनुसार ही दिया गया था। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश (क) एवं (ख) में उल्लेखित अनुसार माननीय प्रश्नकर्ता सदस्य का कोई पत्र लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग को प्राप्त नहीं हुआ है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी नहीं। उत्तरांश (क) में दी गई जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के फाइनेंशियल मैनेजमेंट इन्फोरमेशन सिस्टम (FMIS) के आधार पर आवंटन एवं व्यय के संबंध में जानकारी दी गई है। चश्मे के क्रय मध्य प्रदेश पब्लिक हेल्थ सर्विस कॉर्पोरेशन लिमिटेड द्वारा विगत 5 वर्षों से क्रय नियमों के अनुसार निविदा प्रक्रिया का पालन कर सुनिश्चित किया गया है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
फर्जी आदेश से शासन के रिकार्ड में भूमि दर्ज की जाना
[राजस्व]
28. ( क्र. 1027 ) श्रीमती चंदा सुरेन्द्र सिंह गौर : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या खरगापुर विधान सभा-47 के ग्राम रामसगरा के शासकीय भूमि खसरा क्रमांक 482/1,482/18,482/31, 482/32, 482/36, 483 के कृषि भूमि का असत्य एवं फर्जी आलोच्य आदेश अनुविभागीय अधिकारी बल्देवगढ़ के हस्ताक्षर से जारी कर उक्त शासकीय भूमि, भू-माफियाओं द्वारा हल्का पटवारी को बंधक बनाकर एवं धमका कर शासकीय अभिलेख में नाम दर्ज करा लिये गये थे और उक्त प्रकरण में हल्का पटवारी को निलंबित कर दिया गया था, निलंबित हल्का पटवारी द्वारा उक्त भू-माफियाओं के द्वारा धमकी एवं बंधक बनाये जाने के संबंध में नामजद रिपोर्ट प्रतिवेदन अनुविभागीय अधिकारी बल्देवगढ़ को तथा पुलिस को दिया गया था परन्तु आवेदन क्यों नहीं लिया गया कारण स्पष्ट करें। (ख) क्या उक्त प्रकरण में निलंबित हल्का पटवारी के विरूद्ध एफ.आई.आर. दर्ज की गई है और अभियुक्त निलंबित हल्का पटवारी की पत्नी द्वारा भू-माफिया गिरोह रामकुमार दीक्षित तनय आशाराम दीक्षित नि.छिदारी महेद्र तनय ठाकुरदास यादव नि.रमसगरा, राजेन्द्र तनय नथुआपाल नि. छिदारी, जगदीश उर्फ मिन्टू खरे तनय मथरा प्रसाद खरे नि.गुना के विरुद्ध आवेदन मय शपथ पत्र के अनुविभागीय अधिकारी एवं पुलिस में एफ.आई.आर. दर्ज किये जाने का आवेदन दिया गया परन्तु इन चारों सहअभियुक्तों के विरूद्ध आज दिनांक तक एफ.आई.आर. दर्ज क्यों नहीं की गई कारण स्पष्ट करें तथा एफ.आई.आर. कब तक दर्ज करा दी जावेगी। कृपया समयावधि बतायें? (ग) क्या कूटरचित फर्जी आदेश बनायें जाने के संबंध में राजस्व विभाग द्वारा कब-कब कितनी जांचे कराई गई एवं जांच प्रतिवेदन किस सक्षम अधिकारी के द्वारा बनाया गया क्या कार्यवाही की गई संपूर्ण जानकारी सहित जांच प्रतिवेदन की सत्यापित प्रतियां उपलब्ध करायें एवं निलंबित पटवारी की पत्नी के द्वारा दिये गये शपथ पत्र सहित आवेदन पत्र पर क्या कार्यवाही की गई यदि हाँ, तो जानकारी स्पष्ट करें यदि नहीं, तो क्यों? कारण स्पष्ट करें। (घ) क्या इन चारों सहआरोपियों की जब नामजद रिपोर्ट मय शपथ पत्र देकर निलंबित हल्का पटवारी की पत्नी ने की है तथा सक्षम अधिकारियों के कार्यालयों में आवेदन पत्र देकर मांग भी की गई है फिर भी प्रश्नांश (क) में वर्णित चारों नामजद अभियुक्तों के विरूद्ध प्रश्न दिनांक तक एफ.आई.आर. दर्ज क्यों नहीं की गई हैं कारण स्पष्ट करें। यदि एफ.आई.आर. दर्ज किये जाने की कार्यवाही प्रचलन में है तो कब तक करा दी जावेगी। यदि हाँ, तो कृपया समयावधि बतायें यदि नहीं, तो क्यों? कारण स्पष्ट करें एवं की गई सम्पूर्ण कार्यवाही से अवगत करायें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) खरगापुर विधान सभा-47 के ग्राम रामसगरा के तत्कालीन हल्का पटवारी श्री प्रीतमलाल आदिवासी द्वारा फर्जी आलोच्य आदेश के द्वारा रमसगरा स्थित भूमि खसरा नम्बर 482/1, 482/18, 482/31, 482/32, 482/36, 483 जो कि शासकीय भूमि कृषि सहकारी समिति रमसगरा के नाम दर्ज थी। उक्त भूमि को निजी भूमि स्वामियों के नाम दिनांक 23.03.2024 दर्ज कर दी गई थी जांच में प्रथम दृष्टया पटवारी दोषी पाये जाने पर उन्हें तत्काल प्रभाव से अनुविभागीय अधिकारी बल्देवगढ़ के आदेश क्रमांक 1386/रीडर-2/एसडीओ/2024 दिनांक 09.04.2024 को निलंबित किया गया था। पटवारी द्वारा जिला टीकमगढ़ में भू-माफियाओं द्वारा धमकी दिये जाने या बंधक बनाये जाने संबंधी कोई भी सूचना आज दिनांक तक नहीं दी गई। (ख) जी हाँ, उक्त प्रकरण में तत्कालीन पटवारी श्री प्रीतमलाल आदिवासी जांच उपरांत प्रथम दृष्टया दोषी पाये गये परिणाम स्वरुप उनके विरूद्ध थाना खरगापुर में दिनांक 22.01.2025 को प्राथमिकी दर्ज कराई गई। पटवारी की पत्नी के द्वारा आज दिनांक तक रामकुमार दीक्षित तनय आशाराम दीक्षित निवासी छिदारी, महेन्द्र तनय ठाकुरदास यादव निवासी रमसगरा, राजेन्द्र तनय नथुआ पाल निवासी छिदारी, जगदीश उर्फ मिन्टू खरे तनय मथरा प्रसाद खरे निवासी गुना के विरूद्ध प्राथमिकी दर्ज कराये जाने हेतु कोई आवेदन पत्र जिला टीकमगढ़ में समक्ष में प्रस्तुत नहीं किया गया। अत: संबंधित व्यक्तियों के विरूद्ध आज दिनांक तक कोई कार्यवाही कलेक्टर जिला टीकमगढ़ से प्रस्तावित नहीं की गई। (ग) कलेक्टर जिला टीकमगढ़ के संज्ञान में इस प्रकरण के अलावा अन्य कोई मामला आज दिनांक तक नहीं आया है। इस कारण से अन्य मामलों में कोई कार्यवाही नहीं की गई। प्रकरण पुलिस अन्वेषण होने से मूल नस्ती समस्त दस्तावेजों सहित पुलिस अभिरक्षा में हैं। (घ) उक्त सम्पूर्ण मामले में प्राथमिकी (एफ.आई.आर.) पुलिस थाना खरगापुर में दिनांक 22.01.2025 को तहसीलदार खरगापुर द्वारा दर्ज कराई जा चुकी हैं। अब सम्पूर्ण मामला पुलिस अन्वेषण के अंतर्गत हैं। अत: अब जिला टीकमगढ़ से कोई भी कार्यवाही पृथक से की जाना विधि संगत नहीं हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
जिला अशोकनगर के अंतर्गत संचालित स्कूलों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
29. ( क्र. 1059 ) श्री इंजीनियर हरिबाबू राय : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिले के कई स्कूल ऐसे है, जहां 10 छात्रों पर 4 शिक्षक है एवं कई स्कूलों में छात्रों की संख्या ज्यादा है, पर शिक्षक एक या दो हैं। ज्यादातर शिक्षकों को शहरी क्षेत्रों में प्रतिनियुक्ति के आधार पर रख लिया है। ग्रामीण स्कूलों में शिक्षकों की कमी है। कृपया स्कूलवार/छात्र संख्यावार/शिक्षकों की संख्या आदि की समुचित जानकारी नाम सहित प्रदाय करने कृपा करें। (ख) जिले के बहुतायत स्कूल शिक्षा भवन जर्जर एवं तोड़कर पुन: निर्माण की स्थिति में है। स्कूलों की छते लटक गयी है। बच्चों को खतरा है। ऐसे स्कूलों के भवनों को कब तक पुनर्निर्मित करने की योजना है। (ग) स्कूली छात्रों के लिए शौचालय की व्यवस्था नहीं है। सूची के साथ प्रस्तुत करे कि कितने स्कूलों में छात्रों के लिए शौचालय निर्मित किए गए है और कितने स्कूल शौचालय विहीन है। स्कूलों के नाम सहित सूची प्रस्तुत करें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी नहीं। यह सही नहीं है कि शिक्षकों को शहरी क्षेत्र में प्रतिनियुक्ति के आधार पर रख लिया गया है। शेषांश जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-एक अनुसार है। (ख) प्रश्नाधीन शास हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी से संबंधित जानकारी निरंक है। प्राथमिक एवं माध्यमिक विद्यालयों में 147 भवन जर्जर एवं जीर्ण शीर्ण है। इन विद्यालयों के नवीन भवन निर्माण बजट की उपलब्धता तथा समक्ष समिति की स्वीकृति पर निर्भर है। अत: समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) प्रश्नाधीन सभी हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल में शौचालय व्यवस्था है। अत: शेषांश उद्भूत नहीं होता। प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं की सूची पुस्तकालय में रखे परशिष्टि-दो अनुसार है।
स्कूलों की जल आपूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
30. ( क्र. 1084 ) श्री राजेश कुमार वर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) गुनौर विधानसभा में ऐसे कितने स्कूल है जिनमें हैंडपम्पों के माध्यम से जल आपूर्ति होती थी जिसके स्थान पर लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग पन्ना द्वारा हैंडपम्प निकाल कर सबमर्सिबल पम्प लगा कर पानी की आपूर्ति टंकी के माध्यम से करने का प्रयास किया गया और मौजूदा समय में जल की आपूर्ति बाधित है? स्कूलवार जानकारी देवें। निर्माण एजेन्सी के द्वारा संबंधित स्कूल को उक्त कार्य का आधिपत्य कब सौंपा गया? स्कूलवार विवरण देवें। स्कूल को आधिपत्य सौंपने के कितने दिन बाद जल आपूर्ति बाधित हुई? स्कूलवार विवरण देवें। (ख) क्या प्रश्नांश (क) में वर्णित कार्य की जांच कराई जायेगी? यदि हाँ, तो कब तक जांच कराई जायेगी और यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) कार्य संपादन लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग द्वारा किया गया है। अतः शेषांश उद्भूत नहीं होता।
सहायक शिक्षक से शिक्षक पद पर अपात्रों की पदोन्नति
[स्कूल शिक्षा]
31. ( क्र. 1209 ) श्री प्रदीप पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या आयुक्त रीवा सम्भाग रीवा के आदेश पर संयुक्त संचालक, लोक शिक्षण रीवा के आदेश क्रमांक/स्था-3/सतर्कता/2019/745 रीवा दिनांक 17/12/2019 द्वारा चार सदस्यीय जांच समिति गठित की गई थी? यह जाँच सहायक शिक्षक से शिक्षक पद पर अपात्रों की पदोन्नति किया जाकर शासन को हुई आर्थिक क्षति के संबंध में थी? (ख) क्या संयुक्त संचालक रीवा ने इस जाँच को दबा रखा है इसीलिये जाँच दल के मृत तथा सेवानिवृत्त सदस्य के स्थान पर अन्य सदस्यों की नियुक्ति नहीं की गई है? (ग) क्या जिस लिपिक के विरूद्ध जाँच होना है वह लिपिक डीईओ आफिस सतना में ही पदस्थ है? क्या यह लिपिक सहायक अध्यापक से अध्यापक पदोन्नति में भी दंडित हो चुका है? (घ) यदि प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) हाँ है तो उक्त जाँच समिति पुनर्गठित कर कब तक जाँच करा ली जायेगी? बतायें। क्या आरोपी लिपिक को डीईओ आफिस से हटाया जायेगा? यदि नहीं तो क्यों? कारण और नियम बतायें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। कार्यालय कमिश्नर रीवा संभाग के पत्र दिनांक 14.03.2023 अनुसार संयुक्त संचालक रीवा द्वारा गठित जांच समिति से प्राप्त प्रतिवेदन अनुसार कार्यवाही की जाकर प्रकरण नस्तीबद्ध किया जा चुका है। (ग) जी हाँ। संबंधित लिपिक की कार्यालय संयुक्त संचालक लोक शिक्षण रीवा संभाग रीवा के पत्र क्रमांक/सर्तकता/एम/सतना वि.स./2016/184 रीवा दिनांक 08.11.2016 द्वारा एक वेतन वृद्धि असंचयी प्रभाव से रोके जाने की शास्ति अधिरोपित कर प्रकरण समाप्त किया गया है। (घ) उत्तरांश (ख) के प्रकाश में शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शिक्षक परीक्षा पास कर चुके परीक्षार्थियों की द्वितीय सूची
[स्कूल शिक्षा]
32. ( क्र. 1215 ) डॉ. तेजबहादुर सिंह चौहान : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शिक्षक पात्रता और चयन परीक्षा वर्ग-1 उत्तीर्ण कर चुके परीक्षार्थियों की नियुक्ति सूची आज दिनांक तक मात्र एक बार जारी की गई है? (ख) जबकि हजारों पद रिक्त हैं व परीक्षा उत्तीर्ण कर चुके परीक्षार्थी अगली सूची का इंतजार कर रहे हैं। इन सूचियों के जारी न करने का कारण क्या है और कब तक अगली सूचियां जारी कर दी जाएगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। वर्ष 2023 में आयोजित उच्च माध्यमिक शिक्षक चयन परीक्षा से जारी चयन सूची से नियुक्ति आदेश जारी किये गए हैं। (ख) वर्ष 2023 चयन परीक्षा में प्रवर्गवार विज्ञापित पदों पर ही नियुक्ति की जा सकती है। विज्ञापित पदों पर ही नियुक्ति का प्रावधान है। माननीय उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा उच्च माध्यमिक शिक्षक चयन परीक्षा 2023 की प्रतीक्षा सूची से नियुक्ति आदेश जारी करने पर रोक लगाई गई है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
प्राचीनतम मंदिर और धर्मस्थलों की जानकारी
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
33. ( क्र. 1217 ) डॉ. तेजबहादुर सिंह चौहान : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नागदा खाचरौद विधानसभा क्षेत्र में ऐतिहासिक पुरातत्व एवं प्राचीन मंदिर व धर्मस्थल कौन-कौन से हैं और उनकी संख्या कितनी है? (ख) आगामी सिंहस्थ की दृष्टि से इन स्थानों का जीर्णोद्धार व विकास अत्यंत आवश्यक है इस दिशा में शासन की क्या योजना है एवं किन-किन स्थानों को जीर्णोद्धार व विकास किया जाने वाला है।
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) नागदा खाचरौद विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत 1. श्री मुक्तेश्वर महादेव मंदिर नागदा शहर, 2. श्री नागदाह टेकरी स्थित नागदा शहर, 3. श्री सागोतिमाता मंदिर स्थित पिपलौदा सागोतिमाता, 4. श्री चामुण्डा माता मंदिर स्थित नागदा शहर पुरातत्व एवं प्राचीन महत्व के मंदिर है तथा तहसील खाचरौद अंतर्गत जानकारी निरंक है। (ख) शासन संधारित मंदिरों के जीर्णोद्धार कार्य हेतु जिले द्वारा आयुक्त के माध्यम से नियमानुसार प्रस्ताव प्राप्त होने पर कार्य की औचित्यता एवं बजट की उपलब्धता के आधार पर राशि आवंटित की जाती है। वर्तमान में शासन स्तर पर कोई प्रस्ताव प्राप्त नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मिलावटी खाद्य सामग्री की जांच
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
34. ( क्र. 1222 ) श्री घनश्याम चन्द्रवंशी : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र में विगत 5 वर्षों में किन-किन स्थानों से विभाग द्वारा सेम्पल एकत्रित किए गए जनाकारी प्रदान करने? उक्त सेम्पल में से कितने सेम्पल जांच उपरांत मिलावटी पाए गए तथा कितने सेम्पल गुणवर्ता उक्त पाए गए जानकारी प्रदाय करें? (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित मिलावटी सामग्री के प्रदाय के दोषियों पर क्या-क्या कार्यवाही कि गई है दस्तावेज सहित जानकारी प्रदाय करें? (ग) कालापीपल विधानसभा क्षेत्र में विगत 5 वर्षों में खाद्य सामग्री में मिलावट कि जाने संबंधी कितनी शिकायते प्राप्त हुई है तथा विभाग द्वारा उन शिकायतों पर क्या-क्या कार्यवाही कि गई है तथा कितने दोषियों को दंडित किया गया है? दस्तावेज सहित जानकारी प्रदान करें। (घ) क्या मिलावटी पाए गए सेम्पल कि जांच करने एवं दोषियों पर कार्यवाही करने कि कोई समय-सीमा निश्िचत है यदि हाँ, तो कालापीपल विधानसभा क्षेत्र में ऐसे कितने प्रकरण है जिसमे सेम्पल कि जांच एवं दोषियों पर कार्यवाही समय-सीमा निकलने के बाद भी नहीं कि गई है? उक्त विलंब का क्या कारण है तथा इसके लिए दोषी अधिकारी एवं कर्मचारी पर कोई कार्यवाही की गई है? यदि हाँ, तो क्या? यदि नहीं, तो क्यों नहीं?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) एवं (ख) की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार। (घ) जी हां, खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम 2006, नियम एवं विनियम 2011 में सेम्पल की जांच करने की समय-सीमा धारा 42 की उपधारा 2 अनुसार 14 दिवस निर्धारित की गई है एवं दोषियों पर कार्यवाही करने की समय-सीमा धारा 77 अनुसार अधिकतम 03 वर्ष निर्धारित की गई है। समय-सीमा निकलने के उपरांत कोई प्रकरण न्यायालय में दायर करने हेतु लंबित नहीं है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विस्थापितों को दिये आवासीय पट्टे
[राजस्व]
35. ( क्र. 1329 ) श्री वीरेन्द्र सिंह लोधी : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बंडा विधानसभा की पगराडेम-परियोजना के कमान्ड एरिया से ग्रामीणों को विस्थापित कर ग्राम-डिलाखेडी, तहसील-बंडा के समीप नई-बस्ती में पुनर्वास करवाया गया था? (ख) क्या उक्त पुनर्वासियों को राष्टीय राजमार्ग-934 फोरलाइन-निर्माण प्रोजेक्ट अंतर्गत बंडा-बाईपास के निर्माण के लिये पुनः विस्थापति किया गया है? (ग) अगर हाँ तो उन समस्त पुनः-विस्थापितों की सूची एवं प्रदत्त-मुआवजा राशि की सूची दी जाय। (घ) क्या प्रश्नांश (ख) अनुसार पुनः विस्थापितों को आवासीय-पट्टे दिये गये थे? जिस पर प्लॉट संख्या दर्ज है, पट्टे निरस्त होने की शर्त का उल्लेख नहीं है? (ड.) क्या उनके पट्टे निरस्त होने की सूचना उचित समय पर उन्हें दी गई? अगर हाँ तो प्रत्येक की पावती दी जाय। (च) क्या बड़ी-संख्या में आवासीय-पट्टाधारियों को बिना मुआवजा-राशि दिये प्रशासन द्वारा बलपूर्वक-बेदखल कर बाईपास का निर्माण किया जा रहा है? ऐसे पट्टाधरियों की सूची दी जाय। (छ) क्या बेदखल करने के पूर्व अन्य स्थानों पर पट्टा देने, या मुआवजा-राशि देने का लिखित/मौखिक आसवासन दिया गया? (ज) क्या एक परियोजना से विस्थापित लोगों को बगैर-मुआवजा दिये उनसे पट्टे के रूप में दी गई भूमि इस तरह वापस लेना प्राकृतिक-न्याय के दायरे में है? इस पर स्पष्ट प्रतिवदेन दिया जायेगा? (झ) क्या उक्त अनुसार बेदखली की कार्यवाही गलत है? अगर हाँ तो इसमे कौन-कौन दोषी है? (ण) दोषियों पर क्या और कब-तक कार्यवाही की जायेगी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) कमाण्ड एरिया नहीं, अपितु डूब क्षेत्र से ग्रामीणों को विस्थापित कर ग्राम डिलाखड़ी तहसील बण्डा के समीप नई बस्ती में पुनर्वास करवाया गया है। (ख) जी नहीं। (ग) किसी भी व्यक्ति को पुन: विस्थापित नहीं किया गया है। अर्जित आवासीय भू-खण्डों एवं स्थावर परिसंपत्तियों की स्वीकृत मुआवजा राशि की सूची (प्र.क्र.06 अ/82/22-23 के गणना पत्रक) पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार है। (घ) एवं (ड.) प्रश्नांश (ख) अनुसार प्रश्न उद्भूत नहीं होता है। (च) अ.वि.अ.एवं सक्षम प्राधिकारी बण्डा के भू-अर्जन प्रकरण क्रमांक- 06अ/82/22-23 में पारित अधिनिर्णय दिनांक 23/2/24 अनुसार 49 प्रभावित व्यक्तियों की भूमि/स्थावर परिसंपत्तियों का अर्जन किया जाकर मुआवजा राशि भुगतान की जा चुकी है। पट्टाधारियों की सूची (प्र.क्र.06 अ/82/22-23 के गणना पत्रक पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार है, इसके अतिरिक्त सूची अनुसार 57 पट्टेधारियों जिनके द्वारा मौके पर आवंटित आवासीय भू-खण्ड पर निर्माण कार्य नहीं किया गया था जिससे अधिनिर्णय दिनांक 23/2/24 की कंडिका-02 अनुसार पट्टा प्राप्ति दिनांक से 05 वर्ष की कालावधि के भीतर भूमि पर गृह निर्माण न करने से भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 246 (एक) के उल्लंघन की स्थिति में आवंटित भूमि राज्य सरकार में निहित की गई है। (छ) प्रश्नांश ''च'' अनुसार प्रश्न उद्भूत नहीं होता है। (ज) एवं (झ) उत्तरांश ''च'' अनुसार कार्यवाही की गई है। (ण) उत्तरांश ''च'' अनुसार प्रश्न उद्भूत नहीं होता है।
खान नदी डायवर्सन प्रोजेक्ट
[जल संसाधन]
36. ( क्र. 1344 ) श्री महेश परमार : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) उज्जैन जिले में खान नदी डायवर्सन परियोजना की योजना एवं डिजाइन निर्माण हेतु कितनी परियोजना कंसल्टेंसी फर्म एवं इंजीनियरिंग कंपनियों ने विभाग के साथ सहभागिता की? (ख) खान (कान) नदी डायवर्सन परियोजना के कुल कितने कार्यों के लिए निविदा आमंत्रित की गई? प्रत्येक निविदा की कार्यवाही कितने चरणों में पूर्ण हुई? (ग) खान नदी परियोजना की आवश्यकता और अनुमोदन, टेंडर नोटिफिकेशन, आवेदन आमंत्रण, बीड खुलना और मूल्यांकन, साक्षात्कार और चयन, आदेश जारी करना और अनुबंध, प्रारंभ और निगरानी, समाप्ति और भुगतान के प्रत्येक चरण पर विभाग ने क्या-क्या कार्यवाही की? कार्यादेश और अनुबंध की प्रतियां देवें। (घ) टेंडर की शर्त अनुसार किन-किन कांट्रेक्टरों को कितनी-कितनी राशि के कार्य कितनी-कितनी अवधि में पूर्ण करना हैं? उनकी डी.पी.आर. एवं वित्तीय एवं प्रशासकीय स्वीकृति की प्रति उपलब्ध करावें। (ड.) खान नदी डायवर्सन परियोजना में कौन-कौन सी डिजाइन अनुमोदन हुआ हैं? उनकी प्रति देवें। (च) प्रोजेक्ट अंतर्गत कितनी लंबी सुरंग कितने किलोमीटर तक पानी निकासी हेतु तैयार की जाएगी? कौन-कौन सी संरचनाएं एवं कार्य इस प्रोजेक्ट में सम्मिलित हैं? (छ) इस प्रोजेक्ट में कौन-कौन से विभागों से कौन-कौन से कार्यों प्रयोजनों के लिए जल संसाधन विभाग ने अनुमतियां प्राप्त की हैं? विभागों का नाम उल्लेख करते हुए अनुमतियों की प्रति उपलब्ध कराएं। (ज) विभाग ने नियमित निगरानी प्रगति रिपोर्ट कार्य मूल्यांकन एवं गुणवत्ता जांच के लिए किसे-किसे जवाबदारी दी है? दायित्व निर्वहन की सूची की प्रति देवें।
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) से (ज) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
मंदिर/ट्रस्टों की भूमि बेचने की अनुमति
[राजस्व]
37. ( क्र. 1345 ) श्री भूपेन्द्र सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि सागर जिले में मार्च 2023 से अभी तक किस-किस मंदिर/ट्रस्ट के किन-किन व्यक्तियों को कहाँ-कहाँ, कितनी-कितनी भूमि बेचने की अनुमति किस-किस अधिकारी (पंजीयक सार्वजनिक न्यास) द्वारा, किस उद्देश्य एवं शर्तों के अधीन प्रदान की गई? जानकारी अनुमति आदेश की प्रति सहित खसरावार, हल्कावार व तहसीलवार बतायें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : श्री देव रघुनाथ जी ट्रस्ट बड़ा मंदिर बीना को ग्राम इटावा प.ह.नं. 51 तहसील बीना स्थित भूमि खसरा नंबर 171/1 रकवा 0.344 हेक्टेयर के विक्रय की अनुमति मंदिर के जीर्णोद्धार हेतु निम्न शर्तों के अधीन 1. भूमि का विक्रय वर्तमान गाइड-लाइन अनुसार किया जावे। 2. विक्रय की जाने वाली भूमि की राशि का भुगतान उप पंजीयक के समक्ष क्रेता द्वारा आनलाइन/चैक द्वारा किया जावेगा। 3. विक्रय से प्राप्त राशि मुहत्तमकार एवं अनुविभागीय अधिकारी राजस्व बीना के संयुक्त खाते में रजिस्ट्रीकृत बैंक में जमा की जावे। 4. विक्रय अनुमति 03 माह के लिये मान्य होगी के अधीन मुहत्तमकार/आवेदक राधा मोहन दास पिता मदन मोहन दास को कलेक्टर सागर द्वारा प्रदाय की गई। श्री देव रामलला जी मंदिर गढ़ाकोटा को ग्राम पटेरिया प.ह.नं. 29 तहसील गढ़कोटा स्थित खसरा नंबर 36 रकवा 17.00 हेक्टेयर में से रकवा 1.20 हेक्टेयर भूमि विक्रय की अनुमति मानस भवन, धर्मशाला एवं गौशाला निर्माण हेतु निम्न शर्तों के अधीन 1. भूमि का विक्रय वर्तमान गाइड-लाइन अनुसार किया जावे। 2. विक्रय की जाने वाली भूमि की राशि का भुगतान उप पंजीयक के समक्ष क्रेता द्वारा आनलाइन/चैक द्वारा किया जावेगा। 3. विक्रय से प्राप्त राशि मुहत्तमकार एवं अनुविभागीय अधिकारी राजस्व रहली के संयुक्त खाते में रजिस्ट्रीकृत बैंक में जमा की जावे तथा राशि का आहरण/व्यय अनुविभागीय अधिकारी की अनुमति से ही किया जावे। 4. निर्माण कार्य में व्यय की गई राशि/लेखा व्यवस्थित रूप से संधारित किया जावे। 5. विक्रय अनुमति 03 माह के लिये मान्य होगी के अधीन मुहत्तमकार महंत कमलापत दास चेला महंत परमेश्वरदास विवेकानंद वार्ड गढ़ाकोटा को कलेक्टर सागर द्वारा प्रदाय की गई। श्री देव जगमोहन लाल जी गहोई वैश्य पंचायती ट्रस्ट बड़ा बाजार सागर को ग्राम बम्होरी रेंगुवा प.ह.नं. 49 तहसील सागर नगर स्थित खसरा नंबर 406/1 रकबा 3.04 हे. में से 0.80 हे. भूमि विक्रय करने की अनुमति ट्रस्ट के भवनों के निर्माण, बाउण्ड्रीवॉल, सुरक्षा गार्ड रखने, मकान निर्माण एवं सत्संग हाल निर्माण हेतु निम्न शर्तों के अधीन 1. भूमि का विक्रय शासन द्वारा निर्धारित वर्तमान गाइड-लाइन से कम राशि पर न किया जावे। 2. विक्रय की जाने वाली भूमि की राशि का भुगतान उप पंजीयक के समक्ष क्रेता द्वारा आनलाइन/चैक द्वारा किया जावेगा। 3. विक्रय से प्राप्त राशि अध्यक्ष एवं अनुविभागीय अधिकारी राजस्व सागर के संयुक्त खाते में रजिस्ट्रीकृत बैंक में जमा की जावे तथा राशि का आहरण/व्यय अनुविभागीय अधिकारी की अनुमति से ही किया जावे। 4. निर्माण कार्य में व्यय की गई राशि/लेखा व्यवस्थित रूप से संधारित किया जावे। 5. विक्रय अनुमति 03 माह के लिये मान्य होगी। ट्रस्ट अध्यक्ष मनोज डेंगरे बल्द स्व. कपूरचंद डेंगरे को कलेक्टर सागर द्वारा प्रदाय की गई। आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार।
विक्रय पत्र से नामांतरण पर रोक
[राजस्व]
38. ( क्र. 1374 ) डॉ. चिंतामणि मालवीय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रतलाम जिले में चकबंदी तथा बंदोबस्त कौन से वर्ष में हुआ है। (ख) क्या चकबंदी और बंदोबस्त के रिकार्ड में दर्ज भूमि स्वामियों द्वारा 2017 के पश्चात विक्रय की गई भूमियों के नामांतरण निरस्त किए गए हैं। (ग) क्या 1959 के पूर्व के रिकार्ड से मिलान कर नामांतरण किए जा रहे हैं। (घ) क्या 1959 में भू-राजस्व संहिता लागू होने के समय विभिन्न प्रकार की शासकीय भूमियों को भूमि स्वामी स्वत्व घोषित करने के कानूनी प्रावधान के तहत रतलाम जिले में भी भूमि शासकीय से निजी घोषित हुई है? (ड.) क्या रतलाम जिले में 2017 के पश्चातत ऐसी भूमियों के रजिस्टर्ड विक्रय विलेख के नामांतरण निरस्त किए गए, जिनका स्वत्व 1959 के पूर्व शासकीय था यदि हाँ, तो किस आदेश के तहत निरस्त किए गए?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जिला रतलाम अंतर्गत तहसील रतलाम शहर एवं रतलाम ग्रामीण में वर्ष 1956-57 में, तहसील जावरा में वर्ष 1994-95 में, तहसील पिपलोदा में वर्ष 1996-97 में, तहसील आलोट व ताल में वर्ष 1997-98 में एवं तहसील सैलाना, बाजना व रावटी में वर्ष 1999-2000 में बंदोबस्त का कार्य किया गया है। (ख) जी नहीं। (ग) जिला रतलाम अंतर्गत शासनहित रक्षण की दृष्टि से नामांतरण हेतु बंदोबस्त वर्ष 1956-57 के रिकॉर्ड अवलोकन उपरांत समुचित आदेश पारित किया जाता है। (घ) भूमि स्वामी स्वत्व घोषित करने की अधिकारिता राजस्व न्यायालय को नहीं है। जानकारी निरंक है। (ड.) जी हाँ। निरस्त किये गए है। उक्त आदेश म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 के तह्त किये गये है।
अनुकंपा नियुक्ति के लंबित प्रकरण
[राजस्व]
39. ( क्र. 1375 ) डॉ. चिंतामणि मालवीय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजस्व विभाग से संबंधित अनुकंपा नियुक्ति के कितने मामले रतलाम, उज्जैन तथा देवास जिले में लंबित है? (ख) कोविड में कानून व्यवस्था तथा अन्य ड्यूटी पर तैनाती के दौरान इंफेक्शन से दिवंगत हुए सभी शासकीय सेवकों के उत्तराधिकारियों को अनुकंपा नियुक्ति दे दी गई? (ग) क्या कोविड के ड्यूटी के दौरान दिवंगत हुए सभी शासकीय सेवकों को निर्धारित मुआवजा राशि प्रदान कर दी गई?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) अनुकंपा नियुक्ति के जिला रतलाम में 3, उज्जैन में 2 एवं देवास में 3 प्रकरण प्रचलित हैं। (ख) जिला रतलाम एवं देवास में किसी भी शासकीय सेवक की कोविड में कानून व्यवस्था तथा अन्य ड्यूटी पर तैनाती के दौरान इन्फेक्शन से मृत्यु नहीं हुई है। लेकिन जिला उज्जैन की भू-अभिलेख शाखा में कोविड के दौरान एक पटवारी की मृत्यु हुई, उनके पुत्र को अनुकंपा नियुक्ति दी गई है। (ग) प्रश्नांश ''ख'' के उत्तर के प्रकाश में जिला रतलाम एवं देवास की जानकारी निरंक है। जिला उज्जैन में कोविड के दौरान एक पटवारी दिवंगत हुये थे शासन द्वारा निर्धारित मुआवजा राशि प्रदान की गई है।
कम्प्यूटरों के क्रय पर वित्तीय अनियमितता एवं कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
40. ( क्र. 1389 ) श्री मधु भगत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बालाघाट जिले में हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में वर्ष 2022-23 में 4 करोड़ 35 लाख की आईसीटी लैब की खरीदी gem पोर्टल के माध्यम से की गई है,क्या इतनी बड़ी खरीदी gem पोर्टल के माध्यम से किए जाने संबंधी विज्ञापन किसी भी समाचार पत्रों में नहीं दिया गया, यदि नहीं तो क्यों? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या 4 करोड़ 35 लाख के कम्प्यूटर्स को क्रय करने के बाद न ही उनका भौतिक सत्यापन किया गया और न ही तकनीकी सत्यापन किया गया और बिना तकनीकी सत्यापन के संबंधित फर्म को 75 प्रतिशत राशि किस आधार पर भुगतान की गई है? क्या बिना तकनीकी सत्यापन किए राशि भुगतान करने के निर्देश थे यदि हाँ, तो स्पष्ट करावें? (ग) क्या क्रय किए गए कम्प्यूटर में बहुत सारे कम्प्यूटर बंद है और उन कम्प्यूटरों का भुगतान किया गया है? कम्प्यूटरों की राशि भुगतान कब और कितनी की गई? क्या बिना तकनीकी सत्यापन के भुगतान किया जाना सही है? यदि नहीं, तो बिना तकनीकी सत्यापन किए भुगतान करने वाले अधिकारी, कर्मचारियों पर कोई कार्यवाही की जावेगी, यदि हाँ, तो कब तक?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) :(क) जी हाँ। जेम पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन बिड होने के कारण। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी नहीं। तकनीकी सत्यापन के उपरांत भुगतान किया गया। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं। जी नहीं। उत्तरांश (ख) के अनुसार तकनीकी सत्यापन के उपरांत राशि रू. 31129343.28 का भुगतान दिनांक 21.3.2024 को किया गया है, तकनीकी सत्यापन प्रतिवेदन पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय भूमि पर अतिक्रमण
[राजस्व]
41. ( क्र. 1396 ) श्री प्रहलाद लोधी : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पवई विधानसभा अंतर्गत कितनी-कितनी भूमि किस-किस विद्यालय/अस्पतालों/खेल मैदानों/श्मशानघाटों के नाम पर दर्ज होकर आरक्षित है? क्या उपरोक्त भूमि अतिक्रमण मुक्त है? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में क्या उपरोक्त भूमि पर अतिक्रमण है यदि हाँ, तो इनको अतिक्रमण मुक्त कराने हेतु विभाग द्वारा क्या प्रयास किया जा रहे हैं एवं इनको अतिक्रमण मुक्त करने की कार्यवाही कब तक पूरी हो जाएगी? (ग) क्या विधानसभा पवई अंतर्गत शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय हरदुआ/खमरिया एवं शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सिमरिया में विद्यालय की भूमि पर अवैध अतिक्रमण एवं कब्जा है यदि हाँ, तो विभाग द्वारा इनको अतिक्रमण मुक्त कराने हेतु क्या कोई कार्रवाई की जा रही है यदि हाँ, तो क्या-क्या कार्रवाई कब-कब की गई? जानकारी उपलब्ध करावें? (घ) क्या पवई स्थित खेल स्टेडियम एवं पवई के आसपास अवैध अतिक्रमण एवं कब्जा हो रहा है यदि हाँ, तो विभाग द्वारा इसे रोकने एवं अतिक्रमण मुक्त कराने हेतु क्या कार्यवाही की जा रही है?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) पवई विधानसभा अंतर्गत विद्यालय/अस्पताल/खेल मैदान/श्मशान घाट के नाम दर्ज आरक्षित भूमियों की एवं अतिक्रमित भूमि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में अतिक्रमकों के विरूद्ध म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 248 के तहत न्यायालयीन प्रक्रिया के अनुसार बेदखली की कार्यवाही की रही है। (ग) विधानसभा पवई अंतर्गत शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय हरदुआ/खमरिया एवं शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सिमरिया में विद्यालय की भूमि पर अवैध अतिक्रमण एवं कब्जा नहीं है अत: शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता है। (घ) पवई स्थित खेल स्टेडियम ग्राम पवई की आ.नं. 2753 जुज रकबा 1.343 हे. एवं 2754 रकबा 1.096 हे. भूमि का जुज रकबा 0.677 हे. भूमि न्यायालय कलेक्टर पन्ना के रा.प्र.क्र. 45/अ-19 आदेश दिनांक 28.04.1995 के द्वारा खेल का मैदान (स्टेडियम) दर्ज अभिलेख है। आ.नं. 2753 का जुज रकबा 0.045 हे. नजूल दर्ज है एवं आ.नं. 2754 में 0.677 हे. खेल मैदान (स्टेडियम) एवं 0.419 हे. पर कब्रिस्तान कॉलम नं. 12 पर दर्ज अभिलेख है व मौके पर भी कब्रिस्तान है। आरक्षित खेल मैदान (स्टेडियम) में वर्तमान में कोई अतिक्रमण नहीं हो रहा है। कब्रिस्तान की भूमि पर मुस्लिम समुदाय ही काबिज काश्त है एवं ग्राम पवई से लगी अन्य शासकीय भूमियों पर अतिक्रमण की सूचना हल्का पटवारी व अन्य माध्यम से प्राप्त होने पर म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 248 में न्यायालयीन प्रक्रिया के तहत जुर्माना एवं बेदखली की कार्यवाही प्रचलित है। पूरक जानकारी-पवई विधानसभा अंतर्गत विद्यालय/अस्पताल/खेल मैदान/श्मशान घाट के नाम दर्ज आरक्षित भूमियों की एवं अतिक्रमित भूमि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार।
प्राकृतिक आपदा से प्रभावितों की सहायता
[राजस्व]
42. ( क्र. 1433 ) श्री राजेन्द्र भारती : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश में जुलाई, अगस्त एवं सितम्बर वर्ष 2024 में हुई अतिवृष्टि से किसानों की फसलों का नुकसान, गरीबों के मकानों का नष्ट होना तथा इसी के साथ जन हानि एवं पशु हानि भी हुई थी। यदि हाँ, तो क्या शासन-प्रशासन द्वारा आरबीसी के अनुसार सर्वे कार्य किया था। यदि हां, तो फसलों के नुकसान नष्ट हुये मकानों, दुकानों तथा जन-हानि, पशु हानि का जिलावार, तहसीलवार अलग-अलग विस्तृत विवरण दें। (ग) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित हुये नुकसान का शासन द्वारा कितना आंकलन किया गया? कृपया जिलावार तहसीलवार अलग-अलग जानकारी दें। क्या आपदा प्रबंधन के अंतर्गत राज्य सरकार द्वारा केन्द्र सरकार से सहायता राशि मांगी गई थी। यदि हां, तो कितनी राशि प्राप्त हुई? कृपया विवरण दें? यदि नहीं, तो क्यों? कारण सहित बतायें। (ग) किसानों की फसलों, गरीबों के मकानों, व्यापारियों की दुकानों तथा जनहानि के लिये प्राकृतिक प्रकोप के अंतर्गत आरबीसी के अनुसार सहायता राशि देने का प्रावधान है? यदि हां, तो क्या शासन स्तर पर आपदा प्रबंधन के लिये अलग से बजट का भी प्रावधान रहता है? यदि हाँ, तो वर्ष 2024-2025 में आपदा प्रबंधन के अंतर्गत कितने बजट का शासन द्वारा प्रावधान रखा गया है। कृपया जानकारी दें। (घ) क्या शासन-प्रशासन द्वारा कराये गये सर्वे के अनुसार प्रभावितजनों/पीड़ितजनों को सहायता राशि उपलब्ध कराई गई है? यदि हां, तो कब तक और कितनी-कितनी। यदि नहीं, तो क्यों? कारण सहित बतायें। शासन द्वारा कितनी-कितनी राशि का वितरण किया गया है। कृपया जिलावार/तहसीलवार विवरण दें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। प्रदेश में वर्ष 2024 के माह जुलाई, अगस्त एवं सितम्बर में अतिवृष्टि हुई थी। राजस्व पुस्तक परिपत्र 6-4 के प्रावधानों के अनुरूप सर्वे कार्य कराया गया। फसल क्षति मकान क्षति जनहानि, पशुहानि एवं दुकान क्षति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) के उत्तर में उल्लेखित क्षतियों का आंकलन किया किया जाकर राहत राशि का वितरण किया गया जिसका जिलेवार तहसीलवार विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। जी नहीं, बजट संसाधनों की उपलब्धता होने से राज्य सरकार द्वारा केन्द्र सरकार से सहायता राशि की मांग नहीं की गई। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता। (ग) जी हां, राजस्व पुस्तक परिपत्र 6-4 के अर्न्तगत प्राकृतिक प्रकोपों से फसल क्षति, मकान क्षति, दुकान क्षति, जनहानि, पशुहानि होने पर आर्थिक सहायता राशि दिये जाने का प्रावधान है। आपदा प्रबंधन/प्राकृतिक आपदा से प्रभावितों को राहत सहायता प्रदान करने हेतु बजट का प्रावधान शासन स्तर पर रखा जाता है। वर्ष 2024-25 में आपदा प्रबंधन/प्राकृतिक विपत्ति के कारण राहत हेतु शासन द्वारा रूपये 3512.50 करोड़ का बजट प्रावधान रखा गया है। (घ) जी हां, राज्य सरकार द्वारा प्रभावितों को आर्थिक सहायता राशि उपलब्ध करायी गई, जिसका जिलावार, तहसीलवार विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
उज्जैन सिंहस्थ 2028 हेतु जनस्वास्थ्य सेवाएँ उपलब्ध कराई जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
43. ( क्र. 1488 ) श्री अरूण भीमावद : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सन् 2028 में उज्जैन में सिंहस्थ महापर्व का आयोजन होना है जिसमें करोड़ों की संख्या में श्रृद्धालुओं का आवागमन होना है। जिसमें उनके स्वास्थ्य संबंधी आवश्यकताओं की पूर्ति हेतु शाजापुर विधानसभा क्षेत्र में लोक स्वास्थ्य हेतु कोई कार्य योजना है? (ख) यदि हाँ, तो मक्सी शहर में सिंहस्थ महापर्व के पूर्व ट्रॉमा सेन्टर का निर्माण किये जाने का कोई कार्य योजना प्रस्तावित है? (ग) यदि नहीं, है तो सिंहस्थ महापर्व 2028 में आने वाले श्रृद्धालुओं के स्वास्थ्य हेतु मक्सी शहर में एक नवीन ट्रॉमा सेन्टर का निर्माण किया जाना अत्यंत आवश्यक है। जिसके कारण उज्जैन जिले पर स्वास्थ्य व्यवस्था में सहयोग प्राप्त होगा?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। (ग) वर्तमान प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र मक्सी का सिविल अस्पताल में उन्नयन की स्वीकृति की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है, जिसमें आकस्मिक चिकित्सा संबंधी स्वास्थ्य सुविधाएं भी सम्मिलित है। जी हाँ।
स्वास्थ्य केन्द्रों में पदपूर्ति, सुविधाएं एवं उन्नयन
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
44. ( क्र. 1501 ) श्री कुँवर सिंह टेकाम : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सीधी जिले के तहसील मझौली एवं कुसमी और सिंगरौली जिले के तहसील देवसर में कितने सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, कितने प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, कितने उप स्वास्थ्य केन्द्र एवं कितने पोषण आहार केन्द्र संचालित हैं? जानकारी उपलब्ध करायें। भवन विहीन कितने सामुदायिक, प्राथमिक एवं उप स्वास्थ्य केन्द्र हैं? भवन निर्माण कब तक करा दिया जावेगा? (ख) प्रश्नांश "क" के संदर्भ में संचालित सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, उप स्वास्थ्य केन्द्र एवं पोषण आहार केन्द्र में कितने पद स्वीकृत हैं? स्वीकृत पदों के विरुद्ध कितने चिकित्सक, पैरामेडिकल स्टाफ पदस्थ हैं। जानकारी उपलब्ध करायें। कितने पद रिक्त है? रिक्त पदों की पूर्ति कब तक कर दी जावेगी? (ग) क्या सीधी एवं सिंगरौली जिले में कितने एम्बुलेंस, 108 एम्बुलेंस, जननी एक्सप्रेस एम्बुलेंस एवं शव वाहन उपलब्ध हैं? जानकारी उपलब्ध करायें। मरीजों के लिये एम्बुलेंस की उपलब्धता नहीं हो पा रही है? कारण बतायें। स्वास्थ्य सेवाओं में उपलब्ध एम्बुलेंस किन-किन मरीजों को कहां-कहां से कब-कब सेवायें उपलब्ध कराई गई है? प्रत्येक एम्बुलेंस की लॉगबुक की छायाप्रति वर्ष 2023-24 एवं 2024-25 उपलब्ध करायें। (घ) प्रश्नांश "क" के संदर्भ में कितने प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र को सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, कितने उप स्वास्थ्य केन्द्र को प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में उन्नयन किये जाने का प्रस्ताव है? यदि हाँ, तो जानकारी उपलब्ध करायें। सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र मझौली, कुसमी एवं निवास में एक्स-रे मशीन एवं एक्स-रे टेक्नीशियन उपलब्ध है?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
प्रशासकीय प्रभार एवं आहरण संवितरण अधिकारी
[स्कूल शिक्षा]
45. ( क्र. 1518 ) श्री केशव देसाई : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भिंड जिले में श्री श्यामकिशोर भारद्वाज की नियुक्ति किस पद पर, कहां पर है। ब्लॉक गोहद में इनसे सीनियर शिक्षक होने के बाद भी इन्हें विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी गोहद के प्रशासकीय आहरण संवितरण अधिकार प्रदान किए गए हैं जो नियमानुसार गलत हैं यदि सही नियमों द्वारा प्रदान किये गये हैं तो नियमों की छायाप्रति उपलब्ध करायें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी गोहद का प्रभार नियमानुसार नहीं दिये जाने के कारण श्री भारद्वाज से विकासखण्ड अधिकारी का प्रशासकीय एवं आहरण संवितरण अधिकार वापिस लिये जाने की कार्यवाही की जावेगी। यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो कारण बतायें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) श्री श्याम किशोर भारद्वाज की नियुक्ति उच्च माध्यमिक शिक्षक (नवीन संवर्ग) के पद पर शा.उ.मा.वि.कनाथर में है। जी हाँ। विकासखण्ड गोहद अन्तर्गत कार्यरत वरिष्ठ लोक सेवकों द्वारा बीईओ पद पर कार्य करने में असहमति प्रदान किये जाने के उपरान्त विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी गोहद के पद के प्रशासकीय आहरण संवितरण अधिकार श्री श्यामकिशोर भारद्वाज, उच्च माध्यमिक शिक्षक, शा.उ.मा.वि.कनाथर को कलेक्टर जिला भिण्ड के आदेश क्रमांक जि.शि.अ./स्था/2024/9918 भिण्ड दिनांक 07.10.2024 द्वारा प्रदाय किये गये हैं जो म.प्र.राजपत्र (असाधारण) प्राधिकार से प्रकाशित दिनांक 28.07.2018 की अनुसूची 1 में उच्च माध्यमिक शिक्षक को द्वितीय श्रेणी मान्य किया गया है। राजपत्र, वरिष्ठ लोक सेवकों की असहमति सूची एवं कलेक्टर जिला भिण्ड के आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) उत्तरांश "क" के प्रकाश में आदेश प्रसारित होने से शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
गोहद तहसील में निर्माणाधीन 100 बिस्तरीय अस्पताल
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
46. ( क्र. 1519 ) श्री केशव देसाई : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भिण्ड जिले की गोहद तहसील में नवीन 100 बिस्तरी अस्पताल भवन का निर्माण की स्वीकृत राशि, व्यय राशि एवं कार्य एजेन्सी कौन सी है? कार्य पूर्ण होने की समय-सीमा बतायें। (ख) प्रश्नकर्ता द्वारा निरीक्षण दिनांक 04.12.2024 की निर्माणाधीन अस्पताल भवन का निरीक्षण किया गया, जिसमें पाया कि उक्त कार्य घटिया स्तर का कराया जा रहा है, जिसकी जांच हेतु प्रश्नकर्ता द्वारा कलेक्टर भिण्ड को जांच हेतु कहा गया। क्या उक्त अस्पताल भवन की जांच हेतु जांच दल कब तक गठित किया जावेगा? यदि नहीं, तो क्यों कारण बताये। (ग) नवीन 100 बिस्तरीय अस्पताल भवन को डूब क्षेत्र में बनाये जाने वाले अधिकारियों के विरूद्ध कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक समय-सीमा बतावें। अस्पताल भवन के डूब से बचाव हेतु क्या कार्यवाही की जा रही है?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ख) गुणवत्ता की जांच हेतु कलेक्टर भिण्ड द्वारा जांच दल गठित किया गया है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) प्रकरण परीक्षणाधीन है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है, अस्पताल भवन को डूब क्षेत्र से बचाव हेतु टोवॉल निर्माण के साथ स्टोन पिचिंग किया जाना प्रस्तावित है।
आदिवासी भूमि का गैर-आदिवासी को बिक्री के लिए नियम
[राजस्व]
47. ( क्र. 1546 ) डॉ. हिरालाल अलावा : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विगत 6 वर्षों में आदिवासियों की भूमि नियम-विरूद्ध अवैध ढंग से गैर-आदिवासियों, भूमाफियाओं द्वारा खरीदे जाने के संबंध में प्रश्नकर्ता ने माननीय मुख्यमंत्री, माननीय मंत्री एवं विभाग को कई बार पत्र के माध्यम से अवगत कराया है? उस पर क्या कार्यवाही की गई, प्रति सहित बताएं। (ख) क्या गैर-आदिवासी एवं भूमाफियाओं द्वारा आदिवासियों की भूमि नियम विरूद्ध अवैध ढंग से खरीदे जाने के अनेक मामले सरकार की जानकारी में आए हैं, जिसकी सरकार द्वारा भी कई बार पुष्टि की गई? उक्त के संबंध में की कार्यवाहियों से अवगत कराएं। (ग) क्या संविधान की पांचवी अनुसूची से अधिसूचित क्षेत्रों में आदिवासियों की भूमि गैर-आदिवासियों द्वारा खरीदने पर प्रतिबंध है? आदिवासी क्षेत्रों में गैर-आदिवासियों द्वारा आदिवासी भूमि खरीदने से रोकने के लिए शासन की क्या योजना है, क्या कोई विधेयक लाने की योजना है? (घ) आदिवासी महिलाओं द्वारा गैर-आदिवासी व्यक्ति से शादी करने पर उनके द्वारा आदिवासी भूमि की खरीद पर प्रतिबंध लगाने के लिए कोई विधेयक लाने की योजना बना रही है? यदि नहीं, तो क्यों? यदि हाँ, तो कब तक? (ङ) संविधान की पाँचवीं अनुसूची से अधिसूचित आदिवासी क्षेत्रों में आदिवासियों की भूमि की सुरक्षा के क्या प्रावधान हैं और क्या सरकार इसे और सख्त बनाने हेतु कोई संशोधन प्रस्तावित कर रही है ताकि आदिवासी भूमि गैर-आदिवासियों को बेची न जा सकें?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) कार्यालय को इस संबंध में कोई पत्र प्राप्त नहीं हुआ है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) प्रदेश के कुछ जिलों में नियम विरूद्ध ढंग से भूमि खरीदे जाने के मामले संज्ञान में आये है, जिनकी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-अ'' अनुसार है। (ग) अधिसूचित क्षेत्रों में आदिवासियों की भूमि गैर आदिवासियों को अंतरित किये जाने में म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 165 में प्रावधान दिये गये है। शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता। (घ) म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 165 (6) तथा धारा 170 में यथा आवश्यक प्रावधान विहित किये गये है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ङ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट –'ब' अनुसार है। उत्तरांश (ग) एवं (घ) के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
लोक सम्पत्ति की रक्षा की जानकारी
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
48. ( क्र. 1569 ) श्री यादवेन्द्र सिंह : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या टीकमगढ़ जिले में सार्वजनिक मंदिरों के रख-रखाव हेतु शासन द्वारा मंदिरों की जमीनें है यदि हाँ, तो टीकमगढ़ जिले में किस-किस मंदिर को कितनी-कितनी जमीनें लगाई है? पृथक-पृथक विस्तृत विवरण दें? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में वर्णित मंदिरों की जमीनों को भू-माफियाओं ने छल-कपट पूर्वक बेचना शुरू कर दिया है अथवा किसी तरह सेवारत पुजारियों ने अपना नाम भूमि स्वामी लेख करा लिया है? (ग) प्रश्नांश (ख) में वर्णित भूमियों पर वर्तमान स्थिति में कितने मंदिरों की जमीनों पर सेवारत एवं कितनी जमीनों पर भू-स्वामी दर्ज हो गया है? (घ) विगत 10 वर्ष में कितनी-कितनी भूमियां मंदिरों की विक्रय की गई विस्तृत विवरण दें व झिरकी बगिया श्री हनुमान जी मंदिर की जमीन जो भू-स्वामी कर दी है, सेवायत कब तक कर दी जावेगी यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। (ग) प्रश्न उद्भूत नहीं होता। (घ) विगत 10 वर्षों की विक्रय भूमि की जानकारी निरंक है। जिले से प्राप्त प्रतिवेदन अनुसार वर्तमान राजस्व अभिलेख में झिरकी बगिया श्री हनुमान जी मंदिर के नाम से कोई भूमि दर्ज नहीं है। उक्त मंदिर ग्राम टीकमगढ़ किला स्थित भूमि खसरा नं. 698, 699, 700, 701, 702, 703, 704, 705, 706, 707, 708, 709 कुल किता-12 रकबा 1.020 हेक्टेयर में स्थित है। उक्त भूमि वर्तमान अभिलेख में श्री रामदास बाबा तपसी गुरू सियाशरण पिता दास बाबा तपसी पता झिरकी बगिया के नाम एवं बन्दोबस्ती खतौनी संबंत 2001 में बाबा सियाराम दास वैसन व निवासी झिरकी बगिया टीकमगढ़ के नाम दर्ज है।
टीकमगढ़ जिले के राजस्व रिकार्ड में अनियमितता
[राजस्व]
49. ( क्र. 1570 ) श्री यादवेन्द्र सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या टीकमगढ़ जिले में संवत 2001 (वर्ष 1939-40) में राजस्व भूमि का बंदोबस्त किया गया था? जिसके आधार पर संवत 2015 वर्ष 1959-60 में भू-अधिकार अभिलेख तैयार किया गया था? (ख) क्या एक बंदोबस्त की कार्यवाही के पश्चात दूसरा बंदोबस्त की अवधि 30 वर्ष म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 के अनुसार होना चाहिए। (ग) क्या वर्तमान में नवीन राजस्व अभिलेख तैयार करने की कोई नवीन कार्य योजना तैयार की गई यदि हाँ, तो विस्तृत विवरण दें और यदि नहीं, तो क्यों? कब तक कार्य योजना तैयार कर बन्दोबस्त किया जायेगा? (घ) क्या टीकमगढ़ जिले में राजस्व अभिलेखों की भारी हेरा-फेरी की गई अनेकों ग्रामों में 2015 का रिकार्ड नहीं है जिससे नामांतरण में भी भारी अनियमितताएं हो रही है। उदाहरण के लिए नारगुड़ा, अंनतपुरा, तखा, डुमरउ मोटा, कुंवरपुरा, पहाड़ी खुर्द तहसील टीकमगढ़, बरेठी आदि ग्राम तहसील मोहनगढ़ जिला टीकमगढ़ यदि नहीं, तो संवत 2015 का संपूर्ण रिकार्ड बतावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। (ख) म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 के धारा 85 उपधारा 2 अनुसार किसी क्षेत्र में जहाँ खेती के विस्तार के लिए या कृषि के विकास के लिए पर्याप्त गुंजाइश है या जहाँ की लगान का परिमाण असम्यक रूप से कम है या जहाँ सड़कों, रेलों या नहरों के संनिर्माण के कारण गत बंदोबस्त के पश्चात संसाधनों का द्रुत गति से विकास हुआ है, वहां राज्य सरकार अभिलिखित किये जाने वाले कारणों से ऐसी अवधि नियत कर सकेगी जो तीस वर्ष से कम की हो सकेगी किन्तु वह किसी भी दशा में 20 वर्ष से कम नहीं होगी। वर्तमान में म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 संशोधित 2018 अनुसार उक्त धारा विलोपित है। (ग) नवीन भू-सर्वेक्षण नियम 2020 में दिए गए प्रावधानों अनुसार जिलो द्वारा भू-सर्वेक्षण के प्रस्ताव प्राप्त होने पर नियमानुसार कार्यवाही की जाती है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) टीकमगढ़ जिले में राजस्व रिकार्ड संवत 2015 का प्रश्नानुसार अंकित ग्रामों का रिकार्ड (ग्राम बरेठी को छोड़कर) उपलब्ध है, जो अत्यधिक पुराना होने से जीर्ण-शीर्ण स्थिति में हैं। प्रश्न अनुसार टीकमगढ़ तहसील के ग्राम अनंतपुरा, तखा, डुमरउ मोटा एवं कुंवरपुरा का रिकार्ड अति जीर्ण-शीर्ण एवं ग्राम नारगुड़ा, पहाड़ी खुर्द का रिकार्ड जीर्ण-शीर्ण स्थिति में है एवं तहसील मोहनगढ़ की ग्राम बरेठी का रिकार्ड जमा नहीं हैं। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
जिला अशोकनगर को पर्यटन जिला घोषित किया जाना
[संस्कृति]
50. ( क्र. 1647 ) श्री इंजीनियर हरिबाबू राय : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि जिला अशोकनगर में प्राचीन मां जागेश्वर नगरी चंदेरी पुरातत्व की विरासत से परिपूर्ण हें। प्राचीन जैन अतिशय तीर्थ क्षेत्र नगरी थूबोन जी,विश्व का एक मात्र अद्धेत मत तीर्थ क्षेत्र आनंदपुर, पुरातत्व नगरी ईसागढ़, पुरातत्व प्राचीन क्षेत्र मां बीजासन धाम कदवाया, राजाधिराज राजराजेश्वर की नगरी, श्री तारवाले बालाजी अशोकनगर, प्राचीन जैन मंदिर, हाजरेश्वर मंदिर, मॉं विंध्यावासिनी की प्रति प्राचीन पुरातत्व जमीन के अंदर नगरी तूमेन,विश्व प्रसिद्ध मां करीला धाम माता जानकी बाल्मिकी भगवान का मंदिर,अति प्राचीन जैन अतिशय क्षेत्र मल्हारगढ़ निशईजी एवं अन्य बहुत सारे धार्मिक एवं ऐतिहासिक महत्व के स्थान हैं। पर्यटकों के आवागमन से यहां जिला व्यापारिक एवं आर्थिक रूप से सुदृढ़ होगा। अभी तक जिला अशोकनगर को पर्यटन जिला बनाने की दिशा में क्या प्रयास हुए हैं यदि कोई प्रयास नहीं हुआ है तो पुरातत्व एवं जिले की प्राचीनता को ध्यान में रखते हुए जिला अशोकनगर को पर्यटन जिला घोषित किया जाएगा यदि हाँ, तो कब तक?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : प्रश्नांकित स्थल ऐतिहासिक एवं धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है किन्तु राज्य सरंक्षित स्मारक नहीं है। पर्यटन जिला घोषित करना विभाग के कार्यक्षेत्र में सम्मिलित नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नवीन स्वीकृत स्वास्थ्य केन्द्रों हेतु भूमि आवंटन
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
51. ( क्र. 1820 ) श्री कामाख्या प्रताप सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या छतरपुर जिले के नगर हरपालपुर में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र एवं उप स्वास्थ्य केन्द्र ग्राम दौरिया के तहसील नौगांव के नवीन उप स्वास्थ्य केन्द्र के लिए राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन भोपाल के आदेश क्रमांक/भवन/एनएचए/2023-24/1599 दिनांक 07.03.2024 एवं आदेश क्रमांक 1626 भोपाल दिनांक 06.03.2024 में भवन निर्माण हेतु 15वें वित आयोग से राशि स्वीकृत की गई थी? यदि हाँ, प्रशासकीय स्वीकृति आदेश प्रति उपलब्ध करायें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में नवीन भवन के निर्माण हेतु भूमि आवंटन से संबंधित अधोहस्ताक्षरी ने अपने पत्र कमांक 627-628 एमएलए/2024 दिनांक 10.12.2024 कलेक्टर जिला छतरपुर को पत्र लेख कर भूमि आवंटन से संबंधित आदेश पारित करने के संबंध में लेख किये है। पत्र में उल्लेखित तथ्यों के आधार पर जिला प्रशासन छतरपुर के द्वारा क्या भूमि आवंटन से संबंधित प्रशासकीय आदेश जारी किये है? यदि हाँ, तो आदेश की प्रति उपलब्ध करायें, यदि नहीं, तो क्या कारण है, स्थिति स्पष्ट करें। (ग) क्या जिला प्रशासन छतरपुर के विरुद्ध भूमि आवंटन में लेटलतीफ करने वाले अधिकारी/कर्मचारी के विरुद्ध जनहित से जुड़े मुद्दे पर लापरवाही करने पर निलंबित कर सेवा समाप्त की कार्यवाही प्रस्तावित की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक समय-सीमा बतायें। यदि नहीं, तो क्यों, स्पष्ट करें। (घ) प्रश्नांश (क) में स्वीकृत राशि उक्त दोनों भवन हेतु प्रशासकीय स्वीकृति में उल्लेखित राशि वित्तीय वर्ष 2024-25 31 मार्च की स्थिति में भूमि आवंटन नहीं होने पर क्या राशि लेप्स होगी, ऐसी स्थिति में भूमि आवंटनकर्ता अधिकारी से वेतन/भत्तों से वसूली कर भवन निर्माण की कार्यवाही प्रस्तावित की जावेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। प्रशासकीय स्वीकृति आदेश की प्रति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) जी हाँ। जी नहीं। उप स्वास्थ्य केन्द्र दौरिया हेतु प्रस्तावित भूमि भविष्य में उप स्वास्थ्य केन्द्र के उन्नयन होने की स्थिति को दृष्टिगत रखते हुए भूमि का क्षेत्रफल अपर्याप्त होने से अन्य उपयुक्त शासकीय भूमि का चयन प्रक्रियाधीन है। नगर हरपालपुर में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र हेतु चयनित भूमि श्री 108 श्री धनुषधारी जू महाराज प्रबंधक जिलाध्यक्ष के नाम दर्ज होने से आवंटन नहीं की गयी। (ग) जी नहीं। उत्तरांश (ख) के अंतिम भाग में दिए गए न्यायोचित कारण को दृष्टिगत रखते हुए प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
क्रमोन्नति का लाभ न दिये जाने वालों पर कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
52. ( क्र. 1828 ) श्री शरद जुगलाल कोल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. शासन वित्त विभाग के परिपत्र क्र. सी. 03/09/2017/3/1 दिनांक 24.01.2008 के संलग्न परिशिष्ट में उच्चतर वेतनमान का प्रावधान किया जाकर इसी परिपत्र के परिशिष्ट 2 में शासन के विभिन्न विभागों में ग्रन्थपाल (लाइब्रेरियन) संवर्ग के सामने उल्लेख अनुसार उच्चतर वेतनमानों की पात्रता दी गई है। म.प्र. शासन वित्त क्र. 111/2809/नियम/4 दिनांक 13.2009 के अनुसार म.प्र. शासन स्कूल शिक्षा विभाग में ग्रन्थपाल (लाइब्रेरियन) संवर्ग उच्चतर वेतनमानों को प्राप्त करने की पात्रता नहीं रखता? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में म.प्र. शासन के वित्त विभाग के परिपत्र क्र-सी 3-09/2017/3/1 दिनांक 24.01.2008 के कंडिका 15 में उल्लेखानुसार परिशिष्ट 2 में जिन विभागों/संवर्गों का उल्लेख नहीं किया गया है। उनमें इस प्रावधान को लागू किये जाने का प्रस्ताव प्रमुख सचिव सामान्य प्रशासन विभाग को स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा कब प्रस्तुत किये गये, अगर नहीं प्रस्तुत किये गये तो क्यों कब तक प्रस्तुत कर दिये जावेंगे, अगर नहीं तो क्यों? (ग) प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित कार्यवाही परिपत्र 24.01.2008 के कंडिका 15 स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा किन-किन जिलों द्वारा की गई, अगर नहीं किया गया तो क्यों। इस बावत क्या निर्देश देंगे बतावें एवं म.प्र. शासन वित्त विभाग मंत्रालय वल्लभ भवन भोपाल के परिपत्र क्र. एफ 11/-1/2008/नियम/04 दिनांक 04.08.2008 द्वारा स्पष्टीकरण की गई कंडिका 7 का भी पालन नहीं किया गया तो क्यों? इसके पालन बाबत् क्या निर्देश देंगे बतावें, जबकि प्रश्नांश (ख) अनुसार उल्लेखित आधार पर किया जाना आवश्यक था। इसका पालन न करने और न करने वाले के लिये कौन जिम्मेदार है उन पर कार्यवाही के क्या निर्देश देंगे। (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) में उल्लेखित नियमों एवं निर्देशों का पालन उच्चतर वेतनमानों का लाभ ग्रन्थपाल/लाइब्रेरियन जो एकाकी पद है को लाभ न दिये जाने, लाभ से वंचित रखने के लिये कौन-कौन उत्तरदायी है, उन पर कार्यवाही बावत क्या निर्देश हैं एवं प्रश्नांश (ख) एवं (ग) में उल्लेखित कंडिकाओं क्रमशः 7 एवं 15 का पालन करने हेतु स्कूल शिक्षा विभाग को अभी कितना समय लगेगा जबकि आदेश एवं प्रावधान लागू हुये 16 वर्ष बीत चुके हैं।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) :(क) स्कूल शिक्षा विभाग अंतर्गत नियुक्त ग्रंथपाल के लिये समयमान-वेतनमान का वर्तमान में प्रावधान नहीं है। (ख) प्रकरण से संबंधित प्रस्ताव पर निर्णय हेतु कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) उत्तरांश (ख) अनुसार प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश (ख) अनुसार। शेषांश समय-सीमा बताना संभव नहीं है।
जिम्मेदारों पर कार्यवाही
[परिवहन]
53. ( क्र. 1829 ) श्री
शरद जुगलाल
कोल : क्या
परिवहन
मंत्री महोदय
यह बताने की
कृपा करेंगे
कि (क) शहडोल व
रीवा जिले में
परिवहन विभाग
द्वारा कितने
बसे एवं कितने
अन्य वाहनों
के परमिट एवं
फिटनेस जारी किये
गये का विवरण
देते हुये
बतावें कि
बसों एवं
सवारी वाहनों
के फिटनेस की
जांच हेतु
शासन के क्या
निर्देश हैं
जिन वाहनों के
परमिट जारी
किये गये उनके
फिटनेस की
कार्यवाही
एवं प्रमाण
पत्र हेतु क्या
शर्तें हैं
शर्तों की
प्रति देते
हुये बतावें
कि इनके
फिटनेस हेतु
किन
अधिकारियों
द्वारा प्रमाणित
किया गया के
नाम, पद
सहित विवरण
देवें। (ख)
प्रश्नांश
(क) के तारतम्य
में जो माल
वाहक ट्रक वल्कर
बाइकल अन्य
की कुल
क्षमता क्या
निर्धारित की
गई है। क्षमता
से ज्यादा
भार ढोने पर
उनके
जुर्माने
बावत शासन के क्या
निर्देश हैं
प्रति देते
हुये बतावे कि
वर्ष 2022 से प्रश्नांश
दिनांक तक में
कितने वाहनों
पर कब-कब
कार्यवाही की
गई एवं कितनी
राशि वसूली गई
का विवरण
माहवार,
वर्षवार, जिलेवार
देवें। (ग)
प्रश्नांश
(क) एवं (ख) अनुसार
जो वाहन बिना
परमिट व
फिटनेस के चल
रहे हैं उनकी
जांच हेतु
कितने दल
बनाये गये हैं
उन दलों
द्वारा जांच
उपरांत की गई
कार्यवाही का
विवरण देवें। (घ) प्रश्नांश
(क), (ख)
एवं (ग) अनुसार
बिना परमिट के
वाहनों पर
कार्यवाही न
करने व्यक्तिगत
हित पूर्ति कर
कंडम वाहनों
के फिटनेस
कूटरचित
तरीके से
तैयार कराकर
परमिट देने एवं
कई वर्षों से
एक ही सीट और
जगह में पदस्थ
रहकर शासन के
निर्देशों से
हटकर कार्य
करने के जिम्मेदारों
पर क्या
कार्यवाही
करेंगे बतावें
अगर नहीं तो
क्यों?
परिवहन
मंत्री ( श्री
उदय प्रताप
सिंह ) : (क) शहडोल
व रीवा जिले
में परिवहन
विभाग द्वारा
दिनांक 01.04.2024 से 28.02.2025 तक जारी
किये गये
परमिट एवं
फिटनेस की
जानकारी
निम्नानुसार
है :-
जिला |
वाहन का प्रकार |
जारी किये गये परमिट संख्या |
जारी किये गये फिटनेस संख्या |
शहडोल |
बस |
5175 |
185 |
अन्य वाहन |
1012 |
1933 |
|
रीवा |
बस |
5430 |
658 |
अन्य वाहन |
3813 |
4315 |
वाहनों के फिटनेस जारी करने हेतु मोटरयान अधिनियम, 1988 की धारा 56 में प्रावधान विहित किये गये हैं। उक्त अधिनियम की धारा 84 की उपधारा (क) के अनुसार वाहनों के परमिट जारी करते समय वाहन का फिटनेस वैध होना आवश्यक है। प्रतियां पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। चालू वित्तीय वर्ष 2024-25 में शहडोल जिले में जारी किये गये फिटनेस प्रमाण-पत्र श्री आशुतोष भदौरिया, क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी शहडोल तथा रीवा जिले में जारी किये गये फिटनेस प्रमाण-पत्र श्री मनीष कुमार त्रिपाठी, क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, रीवा द्वारा प्रमाणित किये गये। (ख) माल वाहक ट्रक वल्कर बाइकल अन्य की कुल क्षमता केन्द्र सरकार द्वारा विहित मानकों के अनुसार वाहन निर्माता द्वारा निर्धारित क्षमता के आधार पर पंजीयन प्राधिकारी द्वारा पंजीकृत की जाती है, जो कि विभिन्न प्रकार के वाहनों की भिन्न-भिन्न होती है। क्षमता से ज्यादा भार ढोने पर मोटरयान अधिनियम, 1988 की धारा 113 सहपठित धारा 194 के तहत संबंधित वाहन के विरूद्ध चालानी कार्यवाही की जाकर उक्त अधिनियम की धारा 200 में प्रदत्त शक्तियों के अनुक्रम में राज्य सरकार द्वारा विहित शमन शुल्क की दर के अनुसार संबंधित वाहन से शमन शुल्क वसूल किया जाता है। नियमों की प्रतियां पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। शहडोल व रीवा जिले में परिवहन विभाग द्वारा वर्ष 2022 से प्रश्नांश दिनांक तक में वाहनों पर की गई कार्यवाही एवं वसूली गई राशि का माहवार, वर्षवार, जिलेवार विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'स' अनुसार है। (ग) रीवा जिला अंतर्गत वाहनों की जांच संभागीय परिवहन सुरक्षा स्क्वॉड, रीवा एवं क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, रीवा द्वारा संयुक्त रूप से की जाती है तथा शहडोल जिला अंतर्गत वाहनों की जांच संभागीय परिवहन सुरक्षा स्क्वॉड, शहडोल एवं क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, शहडोल द्वारा संयुक्त रूप से की जाती है। उक्त दलों द्वारा की गई कार्यवाही का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'द' अनुसार है। (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) अनुसार बिना परमिट तथा बिना फिटनेस के वाहनों पर संबंधित अधिकारियों द्वारा समय-समय पर कार्यवाही की जाती है तथा वाहनों के फिटनेस तथा परमिट नियमानुसार ही जारी किये जा रहे हैं। शासन द्वारा जारी स्थानांतरण नीति के अनुसार अधिकारियों/कर्मचारियों के स्थानांतरण किये जाते हैं जिसके परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता।
राजस्व अभिलेखों में परिसम्पत्तियाँ दर्ज की जाना
[राजस्व]
54. ( क्र. 1831 ) श्री शरद जुगलाल कोल : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शहडोल जिले के विधानसभा क्षेत्र ब्यौहारी में शासन की कितनी परिसम्पत्तियां हैं, कितनी शासन के रिकार्ड में दर्ज है। कितनी दर्ज नहीं है, शेष बची हुई है। इस संबंध में शासन के क्या निर्देश हैं जो सम्पत्तियां राजस्व अभिलेख/शासन के रिकार्ड में दर्ज नहीं है उनके रिकार्ड दर्ज कराये जाने हेतु क्या निर्देश देंगे जानकारी दें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार जो परिसम्पत्तियाँ शासन के अभिलेखों में दर्ज नहीं है। उनको शासन के रिकार्डों में दर्ज कराने की जबावदारी किन अधिकारियों/कर्मचारियों की है। अपने उत्तरदायित्वों का निर्वहन नहीं करने पर दोषियों के विरूद्ध क्या कार्यवाही बावत निर्देश देंगे जानकारी दें। (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार शासन की परिसम्पत्तियों के रख-रखाव एवं शासन के अभिलेखों में उनके नाम दर्ज न करने, अवैधानिक रूप से अतिक्रमण कर सम्पत्तियों का निजी उपयोग करने वालो पर कार्यवाही न करने के लिये कौन-कौन उत्तरदायी है कार्यवाही के साथ परिसम्पत्तियों को दर्ज कराने एवं जबरन कब्जे को खाली कराने बावत क्या निर्देश देंगे। अगर नहीं तो क्यों?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) तहसील ब्यौहारी अंतर्गत 567 परिसम्पत्तियां हैं, जिनका कुल ख.नं.481 रकबा 1253.496 हे. तथा तहसील जयसिंहनगर के कुछ भाग तहसील ब्यौहारी अंतर्गत शामिल है जिसमें कुल 615 शासकीय परिसम्पत्तियां दर्ज हैं, जिसमें कुल सर्वे नं.987 रकबा 308.600 हे. समस्त विभाग (आदिवासी विकास,चिकित्सा विभाग, पशु चिकित्सा विभाग,जल संसाधन विभाग, म.बा.वि.,पंचायत विभाग, कृषि विभाग, विद्युत विभाग, कृषि मण्डी, महाविद्यालय, माध्यमिक शाला आंगनवाड़ी आदि) जो सभी अभिलेख/शासन के रिकार्ड में दर्ज है। विभाग से/जांच उपरान्त यदि परिसम्पत्तियां पाई जाती है तो नियमानुसार दर्ज कराये जाने की कार्यवाही की जावेगी। (ख) परिसम्पत्तियों को अभिलेखों में दर्ज कराये जाने के संबंध में संबंधित विभाग की जवाबदारी है। दायित्वों का निर्वहन नहीं होने पर दोषियों के विरूद्ध नियमानुसार कार्यवाही की जा सकती है। (ग) शासन की परिसम्पत्तियों के रख-रखाव तथा परिसम्पत्तियों पर अतिक्रमण संबंधी एवं सम्पत्तियों का निजी उपयोग करने वालों पर कार्यवाही करने के लिये संबंधित विभाग/कार्यालय प्रमुख उत्तरदायी है। शासकीय भूमि पर जबरन कब्जे को खाली कराने बावत म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 248 के तहत नियमानुसार कार्यवाही के प्रावधान है तथा शासकीय भवन पर अनाधिकृत कब्जे में लोक परिसम्पत्ति (बेदखली) अधिनियम, 1974 के अंतर्गत कार्यवाही के प्रावधान है।
ग्रामवासियों को मुआवजा
[राजस्व]
55. ( क्र. 1843 ) श्री विश्वामित्र पाठक : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला सिंगरौली में आवंटित कोल ब्लॉक बंधा में सम्मिलित ग्रामों बन्धा, पिड़रवाह, तेन्दुआ एवं पचौर में भूमि एवं परिसम्पत्ति का किस दर से ग्रामवासियों को मुआवजा दिया जा रहा हैं? जानकारी उपलब्ध कराई जाये। (ख) प्रश्नांश (क) में क्या बन्धा कोल ब्लॉक में सम्मिलित ग्रामों में कलेक्टर गाइड-लाइन से रजिस्ट्री वर्गफिट में हुई एवं मुआवजा की गणना वर्ष 2003 में शासन द्वारा निर्धारित दर से मुआवजा दिया जा रहा हैं। (ग) प्रश्नांश (ख) में यदि हाँ, तो ग्रामवासियों को शासन की नई गाइड-लाइन एवं निर्धारित दर अनुसार अवार्ड पारित कर कब तक मुआवजे का भुगतान किया जायेगा? समय-सीमा बतायें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) बंधा कोल ब्लॉक परियोजना में सम्मिलित ग्रामों बंधा पिडरवाह, तेन्दुहा एवं पचौर में भूमि का प्रतिकर कलेक्टर गाइड-लाइन अनुसार दिया जा रहा है। (ख) बंधा कोल ब्लॉक हेतु मुआवजा की गणना अधिनियम 2013 की धारा-26 की प्रावधानानुसार किया जा रहा है। (ग) भू-अर्जन की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है, जो विहित समय-सीमा में पूर्ण कर ली जावेगी।
भूमिहीनों एवं आवासहीनों के पट्टे वितरण
[राजस्व]
56. ( क्र. 1844 ) श्री विश्वामित्र पाठक : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सीधी सिंगरौली जिले में निवासरत सभी भूमिहीनों एवं आवासहीनों को आवासीय भूमि के पट्टे प्रदान करने के लिये कोई कार्य योजना है? (ख) यदि हाँ, तो कब तक सभी पात्र आवासहीनों को आवासीय भूमि के पट्टे प्रदान किये जायेंगे? (ग) क्या आवासहीनों को प्रदाय पट्टों को राजस्व रिकार्ड में दर्ज करने एवं सीमा निर्धारण करने का प्रावधान है? (घ) प्रश्नांश (ग) में यदि हाँ, तो कब तक राजस्व रिकार्ड में दर्ज कराकर सीमा निर्धारण की कार्यवाही पूर्ण की जायेगी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जिला सीधी एवं सिंगरौली अंतर्गत निवासरत भूमिहीनों एवं आवासहीनों को मुख्यमंत्री आवासीय भू-अधिकार योजना एवं मुख्यमंत्री नगरीय भू-अधिकार योजना के तहत पात्रता अनुसार पट्टे प्रदाय किये गये है। (ख) प्राप्त आवेदन पत्रों में कार्यवाही की जा चुकी है। (ग) म.प्र.शासन राजस्व विभाग के परिपत्र क्रमांक एफ 6-75/20219/सात/शा.3, भोपाल दिनांक 24 सितम्बर, 2020 के कंडिका 3.5 के अनुक्रम में प्रावधान है। (घ) उत्तरांश (ग) अनुसार कार्यवाही की जा रही है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
बाणसागर परियोजना रीवा के द्वारा भूमि अधिग्रहण
[जल संसाधन]
57. ( क्र. 1869 ) श्री श्रीकान्त चतुर्वेदी : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बाणसागर परियोजना के निर्माण में क्या तहसील रामनगर जिला मैहर अंतर्गत ग्राम बन्नेह के किसानों की भूमि अधिग्रहण की गयी हैं? यदि हां, तो अधिग्रहीत भूमि के भूमि स्वामियों को उनकी ली गयी संपूर्ण भूमि की मुआवजा राशि का भुगतान किया जा चुका हैं? यदि हाँ, तो आराजी नं.वार अधिग्रहीत भूमि की भुगतान की गयी राशि तथा किसान के नामवार पिता के नाम सहित जानकारी दी जावें। (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में क्या यह सही है कि त्रुटि के कारण कुछ किसानों की भूमियों का प्रकाशन छूट जाने से उन आराजियों का पुन: प्रकाशन किये जाने के बावजूद भी वर्ष 1994 से अब तक मुआवजा राशि का भुगतान नहीं किया गया हैं? यदि हां, तो क्यों? कारण सहित जानकारी दी जावें, ऐसे किसानों को कब तक उनकी मुआवजा राशि का लंबित भुगतान किया जावेगा?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी हां, अधिग्रहित भूमि का अवार्ड दिनांक 22.02.1995 को अनुमोदन पश्चात समस्त हितग्राहियों को उनकी मुआवजा राशि का भुगतान पूर्व में ही किया जाना प्रतिवेदित है। विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
सिंचाई परियोजनाओं में रिक्त पदों की पूर्ति
[जल संसाधन]
58. ( क्र. 1882 ) श्री सूर्यप्रकाश मीणा : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र शमशाबाद अंतर्गत सिंचाई परियोजना सगढ़ एवं संजय सागर परियोजना के कुशल संचालन हेतु किस-किस श्रेणी के कितने-कितने पद स्वीकृत हैं? श्रेणीवार स्वीकृत पदों की जानकारी दोनों सिंचाई परियोजनावार अलग-अलग उपलब्ध करायें। (ख) प्रश्नांश (क) के क्रम में सिंचाई परियोजनाओं हेतु स्वीकृत पदों में से किस-किस श्रेणी के कितने पद रिक्त हैं? पद रिक्त रहने के कारण सहित जानकारी उपलब्ध करायें। (ग) क्या प्रश्नांश (क) वर्णित परियोजनाओं में कर्मचारियों, अधिकारियों के पद रिक्त रहने से सिंचाई कार्य प्रभावित हो रहे हैं? यदि हाँ, तो सिंचाई सुविधा को व्यवस्थित रूप से संचालित किए जाने के क्रम में विभाग शीघ्र रिक्त पदों की पूर्ति करेगा? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं तो क्यों?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) एवं (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) आवश्यक कार्यों के संपादन हेतु उपलब्ध कार्य बल द्वारा कार्य लिया जा रहा है। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
भवन विहीन शासकीय शालाएं
[स्कूल शिक्षा]
59. ( क्र. 1883 ) श्री सूर्यप्रकाश मीणा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विदिशा जिला अंतर्गत विधानसभा क्षेत्र शमशाबाद के विकासखण्ड नटेरन एवं विदिशा में वर्तमान स्थिति में कितने शासकीय, प्राथमिक शाला, माध्यमिक शाला, हाई एवं हायर सेकेण्ड्री स्कूल भवन विहीन है? भवन विहीन रहने के कारण सहित, संस्था के नाम सहित, विकासखण्डवार जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) प्रश्नांश (क) के क्रम में भवन विहीन शालाओं के लिए भवन निर्माण कार्य हेतु कब तक राशि स्वीकृत की जाएगी? (ग) क्या जो नवीन हाई एवं हायर सेकेण्ड्री स्कूल हैं, जो शासन द्वारा खोले तो गए लेकिन स्कूलों के लिए भवन निर्माण कार्य स्वीकृत नहीं किए जाने से महत्वपूर्ण कक्षाओं की शैक्षणिक व्यवस्था प्रभावित हो रही है? यदि हाँ, तो समस्या के निराकरण हेतु ऐसे सभी शाला भवनों के निर्माण कार्य हेतु राशि स्वीकृत की जाएगी? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत शासकीय हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी निरंक है। भवन विहीन शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं की सूची संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) शासकीय हाई एवं हाई सेकेण्डरी स्कूलों में विद्यार्थी संख्या के मान से अतिरिक्त आवश्यकता होने पर अधोसंरचना के सुदृढ़ीकरण का कार्य बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं के नवीन भवन का निर्माण बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। (ग) जी नहीं। विद्यार्थी संख्या के मान से अतिरिक्त कक्ष की आवश्यकता वाली शालाओं में उपलब्ध बजट अनुसार अतिरिक्त कक्ष निर्माण की व्यवस्था है। शाला भवनों में आवश्यक अतिरिक्त कक्ष निर्माण बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। अतः शेषांश उद्भूत नहीं होता।
विधायक के पत्र पर कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
60. ( क्र. 1913 ) श्री घनश्याम चन्द्रवंशी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता विधायक द्वारा पत्र क्रमांक -990/एम.एल.ए. कालापीपल/2024 दिनाँक 24/10/2024 द्वारा कालापीपल विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत आने वाले खाटसुर विद्यालय, पंचदेहरिया विद्यालय, अरनिया खुर्द विद्यालय, पाडलिया विद्यालय, ढाबला घोसी विद्यालय एवं बिनाया विद्यालय में बॉउन्ड्रीवाल गेट निर्माण, कालापीपल एवं साइकिल स्टेट मंच निर्माण हेतु DPR निर्माण बनकर राशि निर्माण किए जाने का अनुरोध क्या था? यदि हाँ, तो उक्त पत्र पर वर्तमान तक क्या कार्यवाही की है दस्तावेज सहित जानकारी देवें? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित विद्यालय में निर्माण कार्य हेतु कब DPR निर्मित कर राशि आवंटन किया जावेगा? यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों नहीं कारण बतावें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। अधोसंरचना के सुदृढ़ीकरण का कार्य बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। (ख) उत्तरांश (क) के प्रकाश में शेषांश उद्भूत नहीं होता।
करियापाठा डेम का निर्माण
[जल संसाधन]
61. ( क्र. 1922 ) श्री
नितेन्द्र
बृजेन्द्र
सिंह राठौर : क्या जल
संसाधन
मंत्री महोदय
यह बताने की
कृपा करेंगे
कि (क) मा.
मंत्री जी को प्रश्नकर्ता
द्वारा भेजे
गये पत्र
क्रमांक 16 दिनांक 09/02/24 पर प्रश्न
दिनांक तक क्या
कार्यवाही की
गई? संपूर्ण
स्थिति से
अवगत करायें? प्रकरण
कहां लंबित
हैं और क्यों? (ख) विधानसभा
क्षेत्र पृथ्वीपुर
के अंतर्गत
ग्राम विरौरा
खेत एवं विरौरा
पहाड़ के बीच
जलभराव हेतु
डेम निर्माण
कब तक किया
जावेगा?
उक्त
संबंध में अब
तक क्या
कार्यवाही
शासन द्वारा
की गई?
जल
संसाधन
मंत्री ( श्री
तुलसीराम
सिलावट ) : (क) प्रश्न
में उल्लेखित
पत्र में
माननीय सदस्य
द्वारा
करियापाठा
डेम के
निर्माण के
संबंध में लेख
किया है। उक्त
परियोजना के
संबंध में
मैदानी
अधिकारियों
द्वारा योजना
स्थल का
निरीक्षण
करने पर पया
गया कि
प्रस्तावित योजना
स्थल के
डाउनस्ट्रीम
में
डुरियनघाट
परियोजना का
निर्माण कार्य
प्रगतिरत है। करियापाठा
तालाब
निर्माण होने
से डुरियनघाट
परियोजना का
केचमेंट
एरिया कम होगा, जिससे
पानी की आवक
कम होगी। अत:
तकनीकी
दृष्टिकोण से
करियापाठा
तालाब योजना
का निर्माण व्यवहारिक
नहीं है। (ख) उत्तरांश
''क''
अनुसार।
गांवों को केन बेतवा लिंक परियोजना जोड़ा जाना
[जल संसाधन]
62. ( क्र. 1923 ) श्री नितेन्द्र बृजेन्द्र सिंह राठौर : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मा. मुख्यमंत्री जी को प्रश्नकर्ता द्वारा भेजे गये पत्र क्रमांक 175/24, दिनांक 27/12/24 एवं मा. जल संसाधन मंत्री को पत्र क्र. 172/24 दिनांक 19/12/24 पर प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही की गई जानकारी दें। (ख) पृथ्वीपुर विधानसभा क्षेत्र के सिर्फ 30 गाँव ही केन-बेतवा लिंक परियोजना में जोडे़ गये है। बाकी गाँवों को कब उक्त परियोजना में जोड़े जाएंगे? (ग) उक्त संबंध में यदि कोई कार्यवाही प्रचलन में है तो अवगत करावें, यदि नहीं, है तो कब तक उक्त संबंध में कार्यवाही की जावेगी? समय-सीमा बतावें।
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) मान. मुख्यमंत्री जी को प्रश्नकर्ता द्वारा भेजे गये पत्र क्रमांक-175/24, दिनांक 27/12/2024 एवं मान. जल संसाधन मंत्री को पत्र क्रमांक-172/24 दिनांक 19/12/2024 को लेख किये जाने के पूर्व से ही पृथ्वीपुर विधान सभा के 67 ग्रामों का प्राथमिक सर्वेक्षण कार्य पूर्ण हो चुका था। वर्तमान में केन-बेतवा लिंक राष्ट्रीय परियोजना से विधानसभा क्षेत्र 45 पृथ्वीपुर के 104 ग्रामों को सिंचाई का लाभ दिये जाने हेतु कृषि योग्य क्षेत्र का सर्वेक्षण कार्य प्रक्रियाधीन होना प्रतिवेदित है। (ख) जी नहीं, पृथ्वीपुर विधानसभा क्षेत्र के 30 गांव के स्थान पर 104 गांवों का प्राथमिक सर्वेक्षण कार्य एवं तकनीकी मापदंडों के आधार पर सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराये जाने के लिए परियोजना में सम्मिलित किए जाने हेतु कार्यवाही प्रक्रियाधीन होना प्रतिवेदित है। (ग) उपरोक्त के संबंध में विधानसभा क्षेत्र 45 पृथ्वीपुर के 104 ग्रामों में सिंचाई सुविधा विकसित करने के लिये केन-बेतवा लिंक राष्ट्रीय परियोजना के कमाण्ड क्षेत्र में जोड़े जाने के लिये प्राथमिक सर्वेक्षण कार्य किया जाकर आवंटित जल की मात्रा एवं तकनीकी रूप से साध्यता के परीक्षण की कार्यवाही प्रचलन में होना प्रतिवेदित है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
विस्थापित परिवारों को पुनर्वास पट्टा
[राजस्व]
63. ( क्र. 1939 ) श्री कुँवर सिंह टेकाम : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रिहन्द बांध के डूब क्षेत्र ग्राम देवरी, तहसील सिंगरौली, नवगठित जिला सिंगरौली के विस्थापित परिवारों को वर्ष 1960-61 में ग्राम गोभा की राजस्व भूमि का पुनर्वास पट्टा श्री रमाशंकर वैसवार, श्री अमरजीत बैसवार, श्री रामरक्षा वैसवार एवं अन्य परिवारों को दिया गया था? यदि हाँ, तो जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में पुनर्वास पट्टाधारी वर्ष 1960-61 से राजस्व की भूमि पर काबिज काश्त के साथ आबाद हैं? यदि हाँ, तो जानकारी उपलब्ध करायें। ग्राम गोभा की जिस भूमि का वर्ष 1960-61 में पुनर्वास पट्टा दिया गया था, क्या उस समय उक्त भूमि राजस्व की थी या वन भूमि थी? जानकारी उपलब्ध करायें। यदि वन भूमि थी तो राजस्व विभाग के द्वारा पुनर्वास पट्टा कैसे जारी किया गया था? (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में विस्थापित परिवारों को पुनर्वास पट्टा राजस्व विभाग की भूमि पर दिया गया था, लेकिन आज 64 वर्षों बाद वन विभाग राजस्व की भूमि को वन भूमि बताकर जबरन वृक्षारोपण करना चाहते हैं? यदि हाँ, तो जानकारी उपलब्ध करायें। (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में विस्थापित परिवारों को पुनर्वास पट्टा राजस्व भूमि वर्ष 1960-61 में दी गई थी, अब वन भूमि कैसे हो गई? जानकारी उपलब्ध करायें। पुनर्वास पट्टा के तहत काबिज काश्त एवं आबाद विस्थापित परिवारों को यथावत रहने के लिये शासन स्तर पर क्या निर्णय लिया जावेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
केन्द्र सरकार से आंवटित बजट
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
64. ( क्र. 2002 ) श्री भैरो सिंह बापू : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विगत 10 वर्षों में खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग को केंद्र सरकार से कब-कब, किस-किस कार्य के लिए कितना वार्षिक एवं MOU के रूप में बजट प्राप्त हुआ है? (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित बजट का कब-कब, किस-किस कार्य हेतु उपयोग किया गया? उक्त बजट से कौन-कौन से कार्य अभी तक पूर्ण किये जा चुके हैं? क्या यह सही है कि जिस कार्य हेतु बजट प्राप्त हुआ, वो बजट उसी कार्य में प्रयोग हुआ है? (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित बजट में से कितना बजट कब-कब लैप्स हुआ? क्यों लैप्स हुआ, कौन जिम्मेदार है? उस बजट का उपयोग क्यों नहीं किया गया? उपरोक्त MOU के माध्यम से प्राप्त बजट का वर्तमान में किस-किस कार्य में उपयोग किया जा रहा है तथा भविष्य में किस-किस कार्य हेतु उपयोग किया जाएगा और कब तक? (घ) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित बजट का आवंटन जिलों में कार्यों एवं कार्यालयीन व्ययों के लिए भी हुआ है, तो उसका उपयोग जिलों में कहां-कहां, किस कार्य हेतु किया गया है? क्या ऐसा भी है कि जिलों के उपयोग हेतु आवंटित बजट जिलों में नहीं दिया गया? यदि हां, तो क्यों नहीं दिया गया?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) विगत 10 वर्षों में Drug Regulatory System (DRS) के सुदृढ़ीकरण हेतु वित्तीय वर्ष 2018-19 तथा खाद्य सुरक्षा परितंत्र के सुदृढ़ीकरण के कार्यों हेतु वित्तीय वर्ष 2020-21, 2021-22, 2022-23, 2023-24, 2024-25 में बजट/राशि प्राप्त हुई है। वर्षवार गतिविधि/कार्यवार प्राप्त स्वीकृत बजट राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार। (ख) उत्तरांश (क) में उल्लेखित बजट राशि से किये गये कार्यों की वर्षवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार। जी हां, पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार संबंधित कार्यों में बजट का उपयोग किया जा रहा है। (ग) Drug Regulatory System (DRS) के सुदृढ़ीकरण तथा खाद्य सुरक्षा परितंत्र के सुदृढ़ीकरण के कार्यों हेतु CSS अंतर्गत प्राप्त बजट/राशि लेप्स नहीं हुई है। उपरोक्त के आलोक में शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। उत्तरांश "क" में उल्लेखित प्राप्त बजट का भविष्य में उपयोग MOU/Workplan में वर्णित कार्यों हेतु किया जा रहा है। (घ) जी हाँ। MOU/Workplan में दी गई गतिविधियों में उपलब्ध बजट अनुसार आवंटन कर इसका व्यय/उपयोग संबंधित गतिविधियों के लिए ही किया जा रहा है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' अनुसार। उपरोक्त के आलोक में शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जयप्रकाश चिकित्सालय भोपाल में पदस्थ स्टोर कीपर के विरुद्ध शिकायत
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
65. ( क्र. 2014 ) श्री आतिफ आरिफ अकील : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा प्रश्न 108 (क्र. 896) माह फरवरी-मार्च 2024 के उत्तर में राजधानी के जयप्रकाश चिकित्सालय भोपाल में पदस्थ स्टोर कीपर के विरूद्ध प्राप्त शिकायत को संगठन के पंजी क्र. 3002/सी/2023-24 दिनांक 26/10/23 को नस्तीबद्ध किए जाने से अवगत कराया था? (ख) यदि हाँ, तो प्रकरण के संबंध में लोकायुक्त कार्यालय द्वारा मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी भोपाल को कब पत्र लिखा गया और क्या जानकारी उपलब्ध कराई गई? प्रति उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (क) (ख) के परिप्रेक्ष्य में यह अवगत करावें कि संबंधित के विरूद्ध बार-बार शिकायत होना और नस्तीबद्ध होना क्या यह पुनः निष्पक्ष जांच का विषय नहीं है? क्या जांच कराई जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक और यदि नहीं, तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख) मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जिला भोपाल से प्राप्त जानकारी अनुसार पत्र प्राप्त नहीं हुआ। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) प्रश्न क्रमांक 108 (क्र 896) में प्रदान की गई जानकारी के अनुसार प्रश्न उपस्थित नहीं होता। शेष कार्यवाही का भी प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
उर्दू व अन्य शिक्षकों के रिक्त पदों की पूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
66. ( क्र. 2015 ) श्री आतिफ आरिफ अकील : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में नई शिक्षा नीति अनुसार कितने शासकीय स्कूलों में छात्र संख्या के आधार पर उर्दू शिक्षकों की आवश्यकता है? भोपाल संभाग के स्कूलों के नाम, रिक्त उर्दू शिक्षक पदों की संख्या सहित जानकारी दें। (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में क्या कार्यालय आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय को वर्ष 2017 से प्रश्न दिनांक तक भोपाल संभाग के जिला शिक्षा अधिकारियों एवं आमजन से उर्दू शिक्षकों की आवश्यकता वाले मांग पत्र, प्रस्तावित पद रिक्ति से संबंधित पत्र प्राप्त हुये है? यदि हाँ, तो मांग पत्रों की प्रति उपलब्ध करावें तथा प्रश्न दिनांक तक उक्त मांग पत्रों पर क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) वर्ष 2018-19 से प्रश्न दिनांक की स्थिति में भोपाल संभाग के किन-किन प्राथमिक, माध्यमिक, हाई एवं हायर सेकेण्ड्री स्कूलों में किस-किस संकाय के रिक्त पदों की पूर्ति के लिये क्या कार्यवाही की गई है? यह भी अवगत करावें कि किन-किन स्कूलों के प्राचार्यों के पदस्थी उपरांत स्कूल का शिक्षण कार्य एवं परीक्षा फल दिन प्रतिदिन नीचे गिरता रहा और स्कूल से छात्रों की संख्या भी कम होती रही जैसे प्राचार्यों की शिकायत के बावजूद अन्यत्र स्थानांतरित नहीं किया गया ऐसे कौन-कौन प्राचार्य है और उनकी शिकायतों का क्या-क्या निराकरण किया गया? स्कूलवार, वर्षवार बतावें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) :(क) मध्यप्रदेश शासन, स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश दिनांक 15.07.2024 द्वारा शालाओं में नवीन पद संरचना जारी की गई है। शेषांश जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-एक अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-दो अनुसार। शेषांश उत्तरांश ''क'' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-तीन अनुसार है। शेषांश जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-चार अनुसार।
मॉडल स्कूलों में नवीन पदों की स्वीकृति एवं पूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
67. ( क्र. 2030 ) श्री चैन सिंह वरकड़े : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. शासन स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश क्रमांक एफ-44-14/2016/20-2 भोपाल दिनांक 16.09.2016 द्वारा मॉडल स्कूलों में नवीन पदों की स्वीकृति प्रदान की गई है जिसमें चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी (भृत्यों) के पद स्वीकृत नहीं किये गये हैं क्यों? (ख) क्या स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा खोले गये मॉडल स्कूलों में चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी (भृत्यों) के पद स्वीकृत किये जायेंगे? हाँ अथवा नहीं। यदि हाँ, तो उन पदों की पूर्ति कब तक और किस प्रकार से की जावेगी? जानकारी प्रदाय करें। (ग) यदि नहीं, किये गये हैं तो स्कूलों में इस वर्ग के कर्मचारियों का कार्य किनके द्वारा कराया जावेगा? जानकारी प्रदान करें। (घ) मॉडल स्कूलों में 33 कमरें बनाये गये है कि सफाई व्यवस्था किस प्रकार से की जावेगी जबकि ये शिक्षा विभाग के विशिष्ट विद्यालयों के अंतर्गत आते है यदि चतुर्थ श्रेणी के पद की पूर्ति आउटसोर्स से की जाती है तो उनके पारिश्रमिक के भुगतान हेतु शासन द्वारा आवंटन दिया जावेगा? हाँ अथवा नहीं।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। नवीन स्वीकृत संरचना में भृत्य का पद शामिल नहीं है। (ख) पद स्वीकृति अनुसार ही कार्यवाही की जाती है। वर्तमान में ऐसा कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है। (ग) एवं (घ) आदेश दिनांक 16.9.2016 की कंडिका '' 4'' संलग्न परिशिष्ट अनुसार कार्यवाही की जाती है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
भूस्वामियों को प्लाटों पर मकान बनाने की अनुमति
[राजस्व]
68. ( क्र. 2042 ) डॉ. राजेन्द्र कुमार सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भू-माफियाओं के विरूद्ध कार्यवाही करने हेतु सरकार द्वारा कलेक्ट्रेट ऑफिस में 27 जनवरी एवं 6 फरवरी, 2020 में भू-स्वामियों द्वारा दिये गये आवेदन पर भू-खण्ड दिलवाने की कार्यवाही की गई थी? यदि हाँ, तो शिल्पी गृह निर्माण सहकारी समिति मर्यादित, अकबरपुर, कोलार रोड, भोपाल, खसरा नं. 62/1/2 एवं 62/1/1 रकबा 5 एकड़, पटवारी हल्का नं. 39 राजस्व निरीक्षक मंडल-4 मिसरोद त.हुजूर जिला भोपाल में प्लाट क्रमांक 36, 40 एवं अन्य को कलेक्टर महोदय द्वारा गठित जांच समिति द्वारा संपूर्ण जांच कर उन्हें मशीन द्वारा सीमांकन, कब्जा, पजेशन एवं तहसील में नामांतरण किया गया था? नामांतरण के पश्चात क्या भूमि स्वामियों को प्लाट पर मकान बनाने की अनुमति प्रदान की गई है अथवा नहीं यदि अनुमति नहीं की गई है तो क्यों? (ख) न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी, तहसील, हुजूर, जिला भोपाल (म.प्र.) के प्रपत्र राजस्व प्रकरण क्रमांक 61/अ-2/86-87, दिनांक 06.07.1987 को पारित आदेश में बिन्दु क्रमांक 2 के तहत जारी पत्रों की छायाप्रति दें, शिल्पी गृह निर्माण सहकारी समिति मर्यादित, अकबरपुर का अभिन्यास/अनुमोदित लेआउट प्लान, खसरा अक्स, समिति का पंजीयन की छायाप्रति सहित समय दस्तावेज देवें। (ग) क्या शिल्पी गृह निर्माण समिति, अकबरपुर में प्रशासक बनाया है, प्लाट क्रमांक 36, 40 का वर्तमान रजिस्ट्री दर से दिनांक 19.01.2024 को 2 प्रतिशत जमा कर सोसायटी के प्रशासक द्वारा प्लाटों पर मकान बनाने हेतु दिनांक 07.02.2024 को 1 वर्ष की एन.ओ.सी. प्रदान की है? नगर पालिक निगम, वार्ड 83,जोन-18 में प्लाट क्रमांक 36,40 नामांतरण दिनांक 20.05.2024 को कर, सम्पूर्ण धनराशि वर्ष 2024-25 तक जमा करने के पश्चात वार्ड एन.ओ.सी. भी जारी की गई हैं? (घ) क्या कार्यालय नगर पालिक निगम, भोपाल द्वारा अनाधिकृत कालोनी प्रकोष्ठ द्वारा 8 बिन्दुओं की जानकारी उपलब्ध कराने हेतु पत्र क्रमांक 1796/अ.का.प्र./2023 दिनांक 29.11.2023 समिति सदस्यों को जारी किया गया था? 8 बिन्दुओं की जानकारी समिति सदस्यों द्वारा 09.02.2024 को कुछ दस्तावेज दे दिये थे, शेष दस्तावेज शिल्पी गृह निर्माण समिति, अकबरपुर, कोलार रोड के प्रशासक अथवा सहकारिता विभाग से मांगे गये अथवा नहीं यदि नहीं, तो कयों? यदि हाँ, तो नगर निगम द्वारा सदस्यों से दस्तावेज क्यों मांगे जा रहे हैं? (ड.) क्या कलेक्टर महोदय द्वारा दिये गये प्लाटों पर समस्त शासकीय अनुमतियां लेकर दिनांक 17.12.2024 को प्लाट क्र. 36 एवं 40 पर ऑनलाईन बिल्डिंग परमिशन के लिए आवेदन प्रस्तुत किया हैं? वर्ष 1986-87 में संस्था की उक्त भूमि नगर भूमि सीमा अधिनियम 1976 के प्रावधान से मुक्त होने के बावजूद भी आज दिनांक तक बिल्डिंग परमिशन क्यों नहीं दी गई, बिल्डिंग परमिशन कब तक दी जायेगी? समय-सीमा बतायें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ, भू-माफियाओं के विरूद्ध कार्यवाही करने हेतु सरकार द्वारा कलेक्ट्रेट आफिस में भू-स्वामियों के आवेदन पर भूखंड दिलाने की कार्यवाही की गई थी। शिल्पी गृह निर्माण सहकारी समिति मर्यादित अकबरपुर कोलार रोड तहसील हुजूर जिला भोपाल खसरा क्रमांक 61/1/2 एवं 62/1 रकबा 5 एकड़ जिला भोपाल में प्लाट क्रमांक 36, 40 एवं अन्य को कलेक्टर महोदय द्वारा गठित जांच समिति द्वारा जांच कर भू-स्वामियों के भूखंडों का सीमांकन कर कब्जा दिलाया गया था। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी हाँ शिल्पी गृह निर्माण सहकारी समिति मर्यादित अकबरपुर में प्रशासक नियुक्त हैं। प्लाट क्रमांक 36, 40 का वर्तमान रजिस्ट्री दर से दिनांक 19/01/1994 को दो प्रतिशत जमा कर सोसायटी के प्रशासक द्वारा प्लाटों पर मकान बनाने हेतु दिनांक 07/02/2024 को एक वर्ष की एन.ओ.सी प्रदान की हैं। नगरीय विकास एवं आवास विभाग से जानकारी अप्राप्त। (घ) एवं (ड.) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
भूमि स्वामी निर्धारण संबंधी राजस्व अभिलेख
[राजस्व]
69. ( क्र. 2047 ) श्री फूलसिंह बरैया : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दतिया जिले के कस्बा भाण्डेर तहसील भाण्डेर के सर्वे 81, 82, 83 में कितने रकबे में आजादी के पूर्व से कब्रिस्तान दर्ज है, म.प्र. राजस्व दिनांक 25 अगस्त 1989 में म.प्र. वक्फ बोर्ड में दर्ज है। यदि हाँ, तो इस सर्वे नं. पर नाथूराम पुत्र हरप्रसाद के नाम भूमि स्वामी बतौर कैसे दर्ज है? (ख) उक्त सर्वे नम्बरों में श्री नाथूराम पुत्र हरप्रसाद के नाम भूमि स्वामी बतौर दर्ज के विरुद्ध दीवानी प्र.क्र. 14-ए/63 माननीय न्यायालय व्यवहार न्यायाधीश वर्ग-2 भाण्डेर के निर्णय दिनांक 23.03.1964 के पारित आदेश में श्री नाथूराम शर्मा का विक्रय पत्र में उक्त सर्वे नं. का विक्रय पत्र शून्य किया गया था, यदि हाँ, तो निर्णय की प्रति संलग्न की जावे। (ग) कस्बा भाण्डेर का सर्वे नं. 81/1/मिन-1 में कब्रिस्तान कब से दर्ज है तथा इसकी नोइयत कब परिवर्तित हुई है, किसके आदेश से परिवर्तित हुई है आदेश की प्रति संलग्न की जावे एवं प्र क्र. 0623/अ-6/(अ)/2021-22 आदेश दिनांक 19.11.2021 एवं तहसीलदार के प्र.क्र. 002/ब-121/2022-23 आदेश दिनांक 09.04.2022 दो प्रकरणों की प्रतियां संलग्न करे जिससे अभिलेख एवं अद्यतित हुआ है। (घ) किसने उक्त सर्वे नं. 81/1/1 में कब्रिस्तान की कब्रें तोड़कर उस पर अतिक्रमण कर मिट्टी से भराव कर दिया है, नाम स्पष्ट करें, उस अतिक्रमण के संबंध में मुस्लिम समाज ने राजस्व अधिकारियों को शिकायत दर्ज कराई है तो इसकी माप एवं जांच प्रतिवेदन की प्रति उपलब्ध कराई जाये। (ड.) इस प्रकार के भू- माफिया प्रशासन से मिलकर आजादी के पूर्व दर्ज कब्रिस्तान की कब्रें तोड़कर अतिक्रमण करने वाले भूमाफिया पर कार्यवाही करेंगे यदि हाँ, तो कब तक।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) खसरा सम्बत 1999 में सर्वे नं. 81 खसरा में खाना क्रमांक-6 में अब्दुल रहमान खां बगैरह खाना क्र.8 में मन्टू बल्द समशेर अली मौरूसी मु. 1 साल एवं खाना क्र.29 में कब्रिस्तान खाना क्र.30 में रकबा 1 इन्द्राज है। सर्वे नं. 82 83 में उक्त वर्ष में कब्रिस्तान दर्ज नहीं है। सम्बत 2016 में खसरा नं. 81, 82, 83 में नाथूराम पुत्र हरप्रसाद जाति ब्राह्मण का नाम भूमि स्वामी के रूप में दर्ज है। (ख) दिनांक 11.02.2025 को अब्दुल रउफ खान निजाम उद्दीन आदि द्वारा न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी, भाण्डेर में प्रश्नांश (ख) में अंकित माननीय न्यायालय के तथाकथित आदेश के आधार पर इन्द्राज दुरूस्ती की मांग की है। आदेश की छायाप्रति प्रस्तुत की है जो साक्ष्य अधिनियम के अंतर्गत मान्य नहीं है। संबंधित यदि अनुतोष प्राप्त करना चाहता है तो उसे न्यायालय की प्रमाणित प्रति प्रस्तुत कर वाद दायर करना होगा। इस स्तर पर उसे कोई भी अनुतोष दिया जाना संभव नहीं है। (ग) कम्प्यूटर अभिलेख वर्ष 2017-18 में खसरा नं.81/1/मिन-1 रकवा 0.115 है. के खाना क्र. 3 में नाथूराम पुत्र हरप्रसाद जाति ब्राह्मण दर्ज है खाना नं.10 में 0.085 है. पर कब्रिस्तान दर्ज है। वर्ष 2018-19 के खसरा नं.81/1/मिन-1 रकवा 0.115 है. खाना नं.3 में नाथूराम पुत्र हरप्रसाद जाति ब्राह्मण का नाम दर्ज है एवं खाना नं.10 में 0.115 है. में आबादी (गांवठान) दर्ज है आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'अ' अनुसार है। प्र.क्र.- 0623/अ-6अ/2021-22 आदेश दिनांक- 19.11.2021 आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'ब' अनुसार एवं प्रकरण क्र. 002/ब/121/2022-23 आदेश दिनांक- 09.04.2022 की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'स' अनुसार। (घ) सर्वे क्रमांक 81/1/1 वर्तमान राजस्व रिकार्ड में भूमि स्वामी शिवशंकर शर्मा उर्फ नीटू जगदम्बा प्रसाद शर्मा उर्फ बीटू पुत्रगण नाथूराम शर्मा का भाग 1127/1150 व सुनीता देवी पत्नी संतोष कुमार वंशकार भाग 2321150 का नाम भूमिस्वामी स्वत्व पर दर्ज है तथा खसरा के खाना क्रमांक 12 में आबादी (गांवठान) 0.1150 कदीम 0.0300 दर्ज है। उक्त के परिप्रेक्ष्य में कब्रिस्तान की कब्रें तोड़कर उस पर किसी प्रकार का अतिक्रमण और किसी भी स्वरूप को बदलने का प्रश्न उत्पन्न नहीं होता है। प्राप्त शिकायत की जांच स्वयं अपर कलेक्टर एवं अनुविभागीय अधिकारी राजस्व भाण्डेर ने मौके पर जाकर की थी तथा चाहे अनुसार सीमांकन कराया गया था। सीमांकन दिनांक 02.02.2025 से 04.02.2025 कराया गया सीमांकन प्रतिवेदन की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'अ' अनुसार। (ड.) प्रश्नांश (घ) अनुसार जानकारी स्पष्ट न होने से कार्यवाही किया जाना संभव नहीं है।
स्कूल शिक्षा विभाग में कार्यरत N.G.O.
[स्कूल शिक्षा]
70. ( क्र. 2055 ) श्री अनिल जैन कालूहेड़ा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्तमान में स्कूल शिक्षा विभाग अंतर्गत कितने N.G.O. (स्वयंसेवी संस्थाएं) कार्यरत हैं? (ख) ये N.G.O. कब से कार्यरत हैं एवं क्या-क्या कार्य करते हैं? (ग) ये N.G.O. किन-किन, देशी-विदेशी संस्थाओं से वित्तीय सहयोग प्राप्त कर रहे हैं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) से (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
एम.आर.आई. एवं सिटी स्किन की सुविधा
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
71. ( क्र. 2067 ) श्री शैलेन्द्र कुमार जैन : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश स्थित सभी शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों में स्वयं की एम.आर.आई. एवं सिटी स्किन की सुविधा उपलब्ध है? यदि नहीं, तो ऐसे कौन से महाविद्यालय है, जिनमें इन सुविधाओं का अभाव है? (ख) मध्यप्रदेश के जिन चिकित्सा महाविद्यालयों में एम.आर.आई. एवं सिटी स्किन सुविधा उपलब्ध नहीं है, तो क्या शासन स्तर इन चिकित्सा महाविद्यालयों में यह सुविधा उपलब्ध कराये जाने हेतु कोई प्रस्ताव शासन के समक्ष विचाराधीन है? यदि हाँ, तो विवरण सहित बतायें। (ग) क्या बुन्देलखण्ड चिकित्सा महाविद्यालय में स्वयं की एम.आर.आई. एवं सिटी स्किन की सुविधा शुरू कराये जाने का कोई प्रस्ताव शासन के समक्ष विचाराधीन है, यदि हाँ, तो अब तक क्या कार्यवाही प्रचलन में है तथा कब तक मरीजों को यह सुविधा शुरू करा दी जायेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) चिकित्सा महाविद्यालय भोपाल, इंदौर, जबलपुर, रीवा एवं सागर में स्वयं के सी.टी. एवं एम.आर.आई. स्थापित करने हेतु क्रय आदेश जारी किए गए है। वर्तमान में शेष चिकित्सा महाविद्यालयों में उक्त सुविधा हेतु कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है। (ग) उत्तरांश (ख) अनुसार। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
नर्सिंग कॉलेज के भवन का निर्माण
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
72. ( क्र. 2068 ) श्री शैलेन्द्र कुमार जैन : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सागर नगर स्थित बुन्देलखण्ड चिकित्सा महाविद्यालय में नर्सिंग कॉलेज संचालित है, परन्तु इन्हें पृथक से काई भवन नहीं होने के कारण परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है एवं नर्सिंग कॉलेज की मान्यता भी खतरे में है, तो क्या शासन शीघ्र ही स्वयं के नर्सिंग कॉलेज भवन निर्माण करायेगा तथा कब तक? (ख) क्या शासन के समक्ष नर्सिंग कॉलेज के भवन निर्माण का कोई प्रस्ताव विचाराधीन है? यदि हाँ, तो यह कितनी राशि का है तथा वर्तमान में क्या कार्यवाही प्रचलन में है एवं कब तक स्वीकृति प्रदान करा दी जायेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी हाँ। अधिष्ठाता, चिकित्सा महाविद्यालय, सागर से प्रस्ताव संचालनालय मध्यप्रदेश में प्राप्त है। वर्तमान में वित्त विभाग मध्यप्रदेश शासन द्वारा लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग के लिये पूंजीगत कार्यों हेतु सूचकांक 3 निर्धारित किया गया है। निर्धारित सूचकांक अनुसार वर्तमान में विभाग अंतर्गत बैंक ऑफ सेक्शन से शासन ऋणात्मक में है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
राज्य शिक्षा केन्द्र में अधिकारियों की प्रतिनियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
73. ( क्र. 2072 ) श्री अम्बरीष शर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि राज्य शिक्षा केन्द्र भोपाल में अपर संचालक, संयुक्त संचालक आदि पदों पर प्रतिनियुक्ति से पदस्थ अधिकारियों की सूची नाम सहित एवं प्रतिनियुक्ति पर उपस्थित दिनांक सहित भेजे। इन पदों पर प्रतिनियुक्ति पर कितने वर्ष के लिये अधिकारियों को लिया जाता है? प्रतिनियुक्ति अवधि पूर्ण हो जाने के बाद भी अधिकारियों को राज्य शिक्षा केन्द्र भोपाल से कब तक हटाया जावेगा? प्रतिनियुक्ति पूर्ण हो जाने के बाद भी वापिस मूल विभाग को नहीं भेजने के लिये जिम्मेदार अधिकारियों पर क्या एवं कब तक कार्यवाही की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : जी नहीं। राज्य शिक्षा केन्द्र स्कूल शिक्षा विभाग अन्तर्गत संचालनालय है। राज्य शिक्षा केन्द्र में विभिन्न पदों की पूर्ति विभागीय अधिकारियों की पदस्थापना के माध्यम से ही की जाती है। राज्य शिक्षा केन्द्र का पृथक से कोई कैडर नहीं है। ये प्रतिनियुक्ति पर पदस्थ नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पर्यटन क्षेत्र घोषित कर अद्योसंरचनात्मक विकास
[पर्यटन]
74. ( क्र. 2082 ) श्री निलेश पुसाराम उईके : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला-छिंदवाड़ा के तहसील-मोहखेड़ विधानसभा क्षेत्र पांढुर्णा में आदिवासी/जनजातीय समाज का प्राचीनतम दार्शनिक व गौरवपूर्ण 'देवगढ़' किला स्थित है? यदि हाँ, तो क्या शासन/विभाग आदिवासी/जनजातीय समाज की प्राचीन आस्था की धरोहर व गौरवशाली/दार्शनिक ईमारत को प्रदेश के पर्यटन स्थलों की सूची में विधिवत रूप से जोड़ने हेतु कार्यवाही करेगी? यदि हाँ, तो कब तक? क्या इस सम्बंध में स्थानीय जनो व प्रतिनिधियों द्वारा कोई पत्र/ज्ञापन शासन/विभाग को प्राप्त हुए हैं? यदि हाँ, तो उस पर कार्यवाही की गई? यदि नहीं तो कब तक की जावेगी? (ख) क्या जिला-पांढुर्णा में वर्तमान शासन द्वारा घोषित कोई पर्यटन स्थल है? यदि हाँ, तो वे कौन-कौन से व कहां स्थित है? क्या इन पर्यटन स्थलों का आधुनिक संरचनात्मक विकास व संधारण हेतु शासन/विभाग द्वारा कोई राशि स्वीकृत की गई है? यदि हाँ, तो उसकी जानकारी स्थान सहित बतावें? यदि नहीं तो क्यों व कब तक की जावेगी?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। मध्यप्रदेश पर्यटन नीति 2016 यथा संशोधित नीति 2019 में किसी भी स्थल को पर्यटन स्थल घोषित करने का कोई प्रावधान नहीं है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) उत्तरांश (क) अनुसार।
छात्रावासों में भोजन व्यवस्था
[स्कूल शिक्षा]
75. ( क्र. 2149 ) श्रीमती मनीषा सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) श्रीमती अनीता गुप्ता की मूल पदस्थापना कहां और किस पद पर हैं? क्या इन्हें कन्या छात्रावास मऊ एवं कस्तूरबा गांधी कन्या छात्रावास मऊ दोनों छात्रावासों का प्रभार कितने वर्ष पूर्व दिया गया था और क्या शासन के द्वारा पूरे म.प्र.में छात्रावास अधीक्षकों को प्रभार मात्र 3 वर्षों के लिए ही दिये जाने का प्रावधान हैं? किन्तु इन्हें म.प्र. के किस नियम के तहत 6 वर्षों से लगातार छात्रावास का प्रभार दिया गया हैं? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या यह सही है कि प्रत्येक ऐसे शिक्षक जिन्हें छात्रावास का प्रभार दिया जाता हैं? उन्हें छात्रावास के कार्यों के अलावा विद्यालयीन समय में अध्यापन के कार्य भी कराये जाने का शासन स्तर से निर्देश प्राप्त हैं? यदि हाँ, तो निर्देशानुसार संस्था प्रभारी के द्वारा इन्हें कितने कालखण्ड आवंटित किया गया है एवं कौन-कौन से विषय इनके द्वारा पढ़ाया जाता हैं? विगत 5 वर्षों का इनके विषय का परीक्षाफल क्या था? वर्षवार जानकारी उपलब्ध करायें। (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) अनुसार इनके द्वारा दोनों छात्रावासों में छात्राओं को प्रतिदिन मीनू के आधार पर भोजन खिलाया जाता हैं? यदि हाँ, तो उक्त छात्रावासों में कौन-कौन से अधिकारी निरीक्षण किये और कितने-कितने बार बच्चों के साथ बैठकर खाना खाए वर्षवार छात्रावास व अधिकारियों की खाना खाते समय की फोटो एवं निरीक्षण पंजी की छायाप्रति उपलब्ध करावें। (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार भोजन के साथ-साथ निरीक्षणकर्ता अधिकारी के द्वारा छात्राओं को छात्रावास से मिलने वाले तेल, साबुन, कंघी एवं स्कॉलरशिप की वर्षवार पृथक-पृथक छात्रावासों की सूची सहित जानकारी उपलब्ध करावें। (ड.) श्रीमती अनीता गुप्ता को पद से पृथक कर उच्च स्तरीय जांच दल गठित करते हुए विगत 5 वर्षों का दोनों छात्रावासों में दर्ज छात्राओं की जानकारी एवं उन्हें छात्रावास से प्राप्त सुविधाओं व परीक्षाफल की जानकारी पृथक-पृथक उपलब्ध कराये।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) शहडोल जिले में सर्व शिक्षा अभियान अन्तर्गत कन्या छात्रावास एवं कस्तूरबा गांधी कन्या छात्रावास मऊ में श्रीमती अनीता गुप्ता नाम की कोई अधीक्षिका कार्यरत नहीं है और न ही प्रभार दिया गया है। जी हाँ। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) से (ड.) जानकारी उत्तरांश (क) अनुसार।
छात्रावास में अधीक्षक के पद पर प्रतिनियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
76. ( क्र. 2150 ) श्रीमती मनीषा सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छात्रावास अधीक्षक के पद पर शिक्षकों को कितने वर्षों के लिये प्रतिनियुक्ति/संलग्नीकरण कर छात्रावास का प्रभार दिये जाने का शासन स्तर से प्रावधान हैं? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार यदि हाँ, तो श्रीमती सुधा मिश्रा की पदस्थापना शहडोल जिले के किस विद्यालय में और किस पद पर हुई है तथा इनकी पदस्थापना कब और किस आधार पर हुई थी? (ग) क्या श्रीमती सुधा मिश्रा का मूल पद शिक्षक है और इनकी पदस्थापना कस्तूरबा गांधी छात्रावास पैलवाह में अधीक्षक के रूप में विगत 5 वर्ष पहले किया गया था? यदि हाँ, तो क्या शिक्षकों के भांति विद्यालयीन समय में इनके द्वारा शासन के आदेशानुसार कक्षा में उपस्थित होकर पढ़ाए जाने के आदेशों का पालन किया जाता हैं? यदि हाँ, तो किस विद्यालय में कितने-कितने पीरियड किस-किस विषय का इन्हें आवंटित किया गया हैं? जिसमें उपस्थित होकर इनके द्वारा अध्यापन कार्य कराया जाता रहा हैं तथा इन्हें पढ़ाने हेतु प्राप्त विषय के कालखण्ड अनुसार अपने पीरियड में कितने दिनों तक उपस्थित रहे और परीक्षा परिणाम क्या था? (घ) क्या इनके कस्तूरबा गांधी छात्रावास पैलवाह में रहने वाले दो बालिकाओं का अचानक स्वास्थ्य खराब होने से उनकी दर्दनाक मौत हो गई? जिसके जांच के दौरान श्रीमती सुधा मिश्रा के विरूद्ध थाने में प्रकरण पंजीबद्ध हुआ और न्यायालय में इनके विरूद्ध प्रकरण चला? यदि हाँ, तो इनकी गिरफ्तारी होने व प्रकरण के बावजूद इनका उक्त कार्यस्थल से स्थानांतरण कर सुभाषचन्द्र बोस कन्या छात्रावास का प्रभार दिया गया तथा कुछ दिनों के बाद इन्हें कस्तूरबा गांधी छात्रावास का प्रभार पुन: किस आधार पर किसके द्वारा प्रभार दिया गया हैं और क्यों? क्या इनके अतिरिक्त उक्त छात्रावासों का प्रभार किसी अन्य को नहीं दिया जा सकता? इसमें दोषी कौन हैं और उसके विरूद्ध क्या कार्यवाही की जाएगी? (ड.) प्रश्नांश (क), (ख), (ग) एवं (घ) अनुसार संदर्भित बिन्दुओं का उच्चस्तरीय दल गठित कर इन्हें उक्त पद से हटाते हुए निष्पक्ष जांच कराकर दोषी पाये जाने पर इनके विरूद्ध कार्यवाही कराया जाएगा? यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) छात्रावास अधीक्षक के पद पर शिक्षकों को छात्रावास वार्डन का प्रभार 03 वर्ष की अवधि तक दिये जाने का प्रावधान है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ' अ' अनुसार। (ग) श्रीमती सुधा मिश्रा का मूल पद माध्यमिक शिक्षक है। जी हाँ जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट - 'ब' 'स' एवं 'द' अनुसार। (घ) प्रश्नांकित प्रकरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट- 'ई' एवं 'एफ' अनुसार। (ड.) उत्तरांश (क), (ख), (ग) एवं (घ) के आधार पर शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
ईसागढ़ का नाम परिवर्तन
[राजस्व]
77. ( क्र. 2196 ) श्री जगन्नाथ सिंह रघुवंशी : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अशोकनगर जिले के एक तहसील मुख्यालय का नाम ईसागढ़ है जिस स्थान पर एक भी ईसाई नहीं रहता है। इसके बावजूद भी इसका नाम ईसागढ़ ही चला आ रहा है। ऐसा क्यों है, उक्त तहसील मुख्यालय का नाम ईसागढ़ कब और क्यों रखा गया? (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित तहसील मुख्यालय ईसागढ़ का नाम वर्तमान की परिस्थितियों को दृष्टिगत रखते हुए क्यों न परिवर्तित किया जावे। यदि हाँ, तो क्यों न इसका नाम हनुमानगढ़ किया जावे। चूंकि ईसागढ़ में 50 से अधिक हनुमान मंदिर होना और शहर के निवासियों द्वारा ईसागढ़ का नाम हनुमानगढ़ किये जाने की निरंतर मांग की जाना इसका एक कारण है। क्या नाम परिवर्तित करने हेतु शासन कोई कार्यवाही करेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ, अशोकनगर जिले की एक तहसील मुख्यालय का नाम ईसागढ़ है। सन् 1811 में जीन बैप्टिस्ट ने इसे अपने कब्जें में लेकर इस स्थान का नाम ईसागढ़ रखा गया। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार (डिस्ट्रिक्ट सेन्सस हैन्डबुक गुना डिस्ट्रिक्ट 1961) (ख) नाम परिवर्तन का कोई प्रस्ताव/मांग इस कार्यालय को प्राप्त नहीं होने से जानकारी निरंक है।
खसरा नम्बर 3664 विक्रय पत्र पर प्रतिबंधित किया जाना
[राजस्व]
78. ( क्र. 2207 ) श्रीमती ललिता यादव : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्न क्रमांक 1214 दिनांक 18/12/2024 को माननीय मंत्री जी द्वारा उत्तर दिया था कि खसरा नंबर 3664 में बन्दोबस्त से संवत 2008-09 उक्त रिक्त राकड नवेयत दर्ज थी एवं संवत 2009-10 में खासगत नवेयत खसरा नम्बर 3267 एवं संवत 2011-12 में खासगत नवेयत खसरा नंबर 3268 दर्ज की गई थी एवं वर्ष 1979-80 से 2003-04 तक खासगत गाड़ीखाना खसरा नम्बर 3268 दर्ज थी? (ख) यदि हाँ, तो क्या भू-राजस्व संहिता 1959 के नियम के तहत भूमि स्वामी स्वत्व के नाम एक अधिक खसरा नंबर होने पर अन्य शामिल खसरा नंबरों में मूल नाम एवं खसरा नंबर का उल्लेख किया जाता हैं? यदि हाँ, तो क्या खासगत गाड़ीखाना किसी व्यक्ति का मूल नाम हैं? यदि नहीं, तो क्यों लेख था एवं क्या अभिलेख रिकार्ड खसरा पंजी के खसरा नंबर में मूल नाम लेख न होने पर शासन की भूमि परिलक्षित होती हैं? (ग) क्या उक्त खसरा नंबर से खासगत गाड़ीखाना विलुप्त कर दिया गया है? यदि हाँ, तो क्या शासन के नियम अनुसार सक्षम अधिकारी के आदेश से खासगत गाड़ीखाना विलुप्त कर कब किसके नाम लेख किया गया था? आदेश की प्रति उपलब्ध कराई जाए एवं आदेश जारी करने वाले अधिकारी का मूलपद एवं नाम बताएं। (घ) क्या भू-राजस्व संहिता 1959 लागू दिनांक के पूर्व रीवा भू-राजस्व एवं काश्तकार संहिता 1935 लागू थी? (ड.) प्रश्नांश (क) एवं (घ) के अनुसार यदि हाँ, तो क्या सक्षम अधिकारी के आदेश से खसरा नंबर 3664 में खसरा नंबर 3267 के उपरांत 3268 दर्ज किया था? (च) यदि नहीं, तो क्यों कारण स्पष्ट करें? क्या उक्त प्रश्न के माध्यम से तहसीलदार से कलेक्टर तक के अधिकारियों की संज्ञान में आने के उपरांत खसरा नंबर 3664 के समस्त बंटाकों पर स्वप्रेरणा से प्रकरण दर्ज कर युक्ति युक्त सुनवाई तक विक्रय पत्र पर प्रतिबंधित किया जाएगा। (छ) यदि प्रश्नांश (ड.) नहीं तो क्यों कारण स्पष्ट करें? क्या उक्त भूमि के विक्रय पत्र निष्पादित होने के उपरांत तहसीलदार से कलेक्टर तक के अधिकारियों द्वारा शासन दर्ज करने के आदेश पारित करता हैं तो उक्त प्रश्न का उत्तर देने वाले तहसीलदार से कलेक्टर तक के अधिकारी दोषी होंगे? उक्त प्रश्न का उत्तर देने वाले तहसीलदार से कलेक्टर तक के अधिकारियों के मूलपद एवं नाम बताएं?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। मध्यप्रदेश भू-राजस्व संहिता 1959 की किसी भी धारा में बसरा लेखन संबंधी उपबंध नहीं है। खसरा में बसरा लेखन की प्रक्रिया परंपरा अनुसार है। रियासतकालीन की वह भूमि जिस पर राजा की गाडियां रखने के लिए उपयोग की जाती है वह भूमि खासगत गाडीखाना कहलाती थी एवं भारत सरकार के गृह मंत्रालय द्वारा जारी इन्वेट्री में चडू छतरपुर गाडी खाना के रूप में दर्ज है, जो तत्कालीन राजा की निजी भूमि है शासन की भूमि परिलक्षित नहीं होती है। (ग) मौजा छतरपुर के भूमि खसरा नंबर 3664 में वर्तमान रिकार्ड के अनुसार कई बटांक हो चुके है, जिसमें मात्र एक बटांक खसरा नंबर 3664/5/1/1/1 पर एक हिस्सेदार के साथ में खासगत गाडीखाना दर्ज है शेष बटांकों में खासगत गाडीखाना दर्ज नहीं है। केवल खासगत गाडीखाना शब्द विलुप्त करने का आदेश किसी भी सक्षम अधिकारी द्वारा नहीं दिया गया है। इसलिए आदेश की प्रति उपलब्ध कराया जाना संभव नहीं है। नामांतरण, वसीयतनामा एवं दान पत्र में प्राप्त भूमि के नामांतरण के पश्चात खासगत गाडीखाना का नाम हटाकर वसीयत ग्रहीता, क्रेता एवं दान ग्रहीताओं के नाम नामांतरण आदेश पारित होने पर दर्ज किये गये है। परिवर्तन संबंधी अनुलग्नक पृथक से संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 लागू होने के पूर्व मध्यप्रदेश के विभिन्न क्षेत्र में भिन्न-भिन्न अधिनियम लागू थे। इसी तारतम्य में छतरपुर जिले में विंध्य क्षेत्र टेनडेंसी एक्ट 1953 लागू था। (ड.) जी नहीं। किसी भी सक्षम अधिकारी के आदेश से बसरा परिवर्तन नहीं किया गया है। (च) संवत 2011 में खासगत खसरा नंबर 3268 दर्ज हुआ, जिस पर कोई आदेश अंकित नहीं है। शेष प्रश्नांश जांच का विषय है। (छ) जांच उपरांत ही तत्संबंध में निर्णय लिया जायेगा।
राज्य शिक्षा केन्द्र में प्रतिनियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
79. ( क्र. 2258 ) श्री देवेन्द्र पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राज्य शिक्षा केन्द्र अंतर्गत संचालित जिला शिक्षा केन्द्र एवं जनपद शिक्षा केन्द्र कार्यालय में APC, बीएसी, जनशिक्षक के पदों पर प्रतिनियुक्ति से भरे जाने का क्या प्रावधान हैं एवं कितने वर्षों के लिए प्रतिनियुक्ति पर पदस्थ किया जाता हैं स्पष्ट करें? (ख) भोपाल संभाग अंतर्गत जिला शिक्षा केन्द्र में पदस्थ APC, बीएसी, जनशिक्षक की प्रतिनियुक्ति का विज्ञापन कब जारी किया गया? क्या शासन नियमों के अनुसार प्रतिनियुक्ति पर पदस्थ किया गया हैं? यदि नहीं, तो क्यों एवं जारी विज्ञापन की प्रति उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (ख) के अनुसार जिन लोक सेवकों को बिना विज्ञापन जारी किए रखा गया है अथवा निर्धारित प्रतिनियुक्ति अवधि समाप्त हो चुकी हैं इन्हें कब तक हटाया जाएगा? अवधि बतावें एवं दोषी अधिकारी के विरूद्ध विभाग द्वारा क्या कार्रवाई की जावेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार है। (ख) ए.पी.सी. के पदों की पूर्ति के संबंध में विज्ञापन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार है। बी.ए.सी. एवं जनशिक्षकों की सेवाएं वरीयता सूची से लिए जाने का प्रावधान है। जी हाँ। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' अनुसार है।
पात्र नायब तहसीलदारों की पदोन्नति
[राजस्व]
80. ( क्र. 2336 ) श्री मनोज नारायण सिंह चौधरी : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि माननीय राजस्व मंत्री महोदय के नेतृत्व में राजस्व विभाग निरंतर अच्छा काम कर रहा है। किन्तु राजस्व मंत्री महोदय द्वारा प्रमुख सचिव महोदय राजस्व को समस्त पात्र नायब तहसीलदारों को कार्यवाहक सूची में नाम जुड़वाये जाने का निवेदन किया है। इस संबंध में आज दिनांक तक कार्यवाही पूर्ण क्यों नहीं हो पाई? उक्त कार्यवाही पूर्ण होने में कितना समय लगेगा? माननीय मंत्री महोदय द्वारा किसानों के हित में उक्त नोटशीट विभाग को प्रेषित की गई है। उक्त नोटशीट पर कार्यवाही पूर्ण नहीं होने के पीछे कौन-कौन अधिकारी/कर्मचारी जिम्मेदार हैं?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : जी हाँ। आवश्यक्तानुसार वरिष्ठ प्रभार देने संबंधी कार्यवाही की जाती है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
राजस्व निरीक्षक के रिक्त पदों पर नियुक्ति
[राजस्व]
81. ( क्र. 2337 ) श्री मनोज नारायण सिंह चौधरी : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि प्रश्नकर्ता विधानसभा क्षेत्र हाटपिपल्या के साथ ही सम्पूर्ण देवास जिले में राजस्व निरीक्षक के पदों की कमी हैं, जिस कारण राजस्व के समस्त मामलों के कार्य होने में महीनों लग जाते हैं। जिले में कितने पद राजस्व निरीक्षकों के स्वीकृत है एवं इसके विरूद्ध कितने पदों पर अभी राजस्व निरीक्षक कार्यरत हैं? यदि रिक्त पद हैं तो उक्त रिक्त पदों पर कब तक नियुक्तियां हो जाएगी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : जी हाँ। किन्तु देवास जिले में राजस्व का कार्य प्रभावित न हो इस हेतु 14 पटवारियों को प्रभारी राजस्व निरीक्षक का प्रभार सौंपा गया है, साथ ही शासन द्वारा 99 पदों पर नवीन पटवारियों की भर्ती भी की गयी है। जिले में 43 पदराजस्व निरीक्षक के स्वीकृत है, जिनके विरुद्ध 17 राजस्व निरीक्षक कार्यरत है। आवश्यकतानुसार समय-समय पर पद पूर्ति की कार्यवाही की जाती है। कार्य सुचारू रूप से संचालित हो 14 पटवारियों को प्रभारी राजस्व निरीक्षक को प्रभार दिया गया है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
शासकीय भूमि को आवासीय भूमि घोषित किया जाना
[राजस्व]
82. ( क्र. 2355 ) श्री नीरज सिंह ठाकुर : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बरगी विधानसभा क्षेत्रांतर्गत आने वाली जनपद पंचायत जबलपुर/शहपुरा की अधिकांश ग्राम पंचायतों के निवासियों को प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ आवासीय भूमि के पट्टे नहीं होने के कारण प्राप्त नहीं होने की जानकारी देकर ग्रामों में स्थित शासकीय भूमि को आबादी भूमि घोषित करने हेतु लगातार मांग की जा रही है। प्रश्नकर्ता द्वारा भी जनहित की मांग के संदर्भ में लगातार पत्राचार कर ग्राम पंचायतों की शासकीय भूमि को आबादी भूमि घोषित करने हेतु प्रयास किये जा रहे हैं। (ख) उक्त संबंध में प्रश्नकर्ता द्वारा प्रश्न दिनाँक तक दिये गये प्रस्तावों पर क्या कार्यवाही की गई? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार बरगी विधानसभा क्षेत्रांतर्गत आने वाली जनपद पंचायत जबलपुर/शहपुरा की कितनी ग्राम पंचायतों में स्थित शासकीय भूमि को आबादी भूमि घोषित किया है?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। न्यायालय कलेक्टर जबलपुर के रा.प्र.क्र. 0001/अ-59/2024-25 आदेश पारित दिनांक 03/09/2024 के अनुसार आबादी घोषित कर दी गयी है। बरगी विधानसभा क्षेत्रांतर्गत आने वाली जनपद पंचायत शहपुरा अंतर्गत ग्राम बसेडी स्थित भूमि ख.नं. 125 रकबा 1.22 हेक्टर में से 0.82 हेक्टर भूमि में माननीय विधायक महोदय विधानसभा क्षेत्र 96 बरगी के पत्र क्रमांक 1720 दिनांक 08/10/2024 आबादी घोषित किये जाने हेतु प्रस्ताव पर कार्यवाही अनुविभागीय स्तर पर प्रक्रियाधीन है। (ख) एवं (ग) उत्तरांश (क) अनुसार।
कानियाखेड़ी गुराड़िया लघु सिंचाई योजना का निर्माण कार्य
[जल संसाधन]
83. ( क्र. 2420 ) श्री आरिफ मसूद : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला सीहोर तहसील आष्टा के अंतर्गत कानियाखेड़ी गुराडिया वर्मा, लघु सिंचाई योजना का कार्य निर्माणधीन हैं? (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में क्या नर्मदा पार्वती लिंक परियोजना प्रथम, दूसरा चरण के कमाण्ड क्षेत्र डूब क्षेत्र में सिंचाई के लिये लाइन बिछाई गई हैं? यदि हाँ, तो जानकारी उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में क्या तहसील इछावर के हरसपुर, कुण्डीखाल, लालियाखेड़ी, दुदलई, दौलतपुर, रूघनाथपुरा, रूपदी, रूपादेह, गाछिया, डूडलावा, बोरदीखुर्द, देवपुरा एवं बावडिया गौसाई नर्मदा पार्वती लिंक परियोजना के चरण क्र.1 व 2 में स्वीकृत होकर जुड़े थे? उल्लेखित गांवों के कृषकों से जलाशय के कमाण्ड क्षेत्र में पाइप-लाइन डालने की सहमति कितने कृषकों से प्राप्त की गई जानकारी दें? क्या बिना कृषकों की सहमति से लाइन बिछाने का कार्य किया गया? यदि हाँ, तो इसके लिए कौन दोषी हैं? (घ) प्रश्नांश (ग) के परिप्रेक्ष्य में क्या उल्लेखित गांवों को योजना से पृथक कर भोपाल जिले के फंदा ब्लॉक के गांव जोडे़ गये जो कि इस योजना में शामिल नहीं थे? किन कारणों से जुड़े नाम को अलग किया तथा जो गांव नहीं जुड़े थे उन्हें जोड़ा गया?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जिला सीहोर तहसील आष्टा के अंतर्गत कान्याखेड़ी सिंचाई परियोजना निर्माणाधीन होना तथा गुराडिया वर्मा जलाशय निर्माणाधीन नहीं होना प्रतिवेदित है। (ख) नर्मदाघाटी विकास प्राधिकरण से प्राप्त उत्तर अनुसार प्रश्नांश (ख), (ग) एवं (घ) का उत्तर निम्नानुसार है:- नर्मदा पार्वती लिंक परियोजना प्रथम एवं दूसरा चरण के कमाण्ड क्षेत्र डूब क्षेत्र में सिंचाई के लिये लाइन नहीं बिछाई जाना उल्लेखित है। (ग) प्रश्नांश में उल्लेखित गांव नर्मदा पार्वती लिंक परियोजना प्रथम एवं दूसरा चरण में नहीं जुड़े होना उल्लेखित किया गया है। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश (ग) अनुसार।
एकपनिया लघु सिंचाई परियोजना की स्वीकृति
[जल संसाधन]
84. ( क्र. 2421 ) श्री आरिफ मसूद : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला सीहोर तहसील इछावर के अंतर्गत एकपनिया लघु सिंचाई परियोजना स्वीकृत की गई थी, किन्तु बाद में इस योजना को अस्वीकृत कर दिया गया था? यदि हाँ, तो कब आदेश सहित जानकारी उपलब्ध करावें? (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में क्या माननीय राजस्व मंत्री जी द्वारा उक्त योजना को निरस्त करने के संदर्भ में नोटशीट भेजी गई थी यदि हाँ, तो? उक्त संबंध में भेजी गई समस्त नोटशीटों की प्रति उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में क्या यह कहना सही है कि सीहोर जिले के पूर्व में निर्मित लघु सिंचाई योजना के कमाण्ड क्षेत्र बिछाई गई नर्मदा पार्वती लिंक परियोजना में पानी ओवरलेप के कारण एकपनिया लघु सिंचाई योजना निरस्त की गई? यदि हाँ, तो जानकारी उपलब्ध करावें एवं कनियाखेड़ी जलाशय तहसील आष्टा निर्माणाधीन एवं एकपनिया लघु सिंचाई योजना की स्वीकृत किन कारणों से निरस्त की गई तथा उसकी लागत क्या थी? (घ) प्रश्नांश (ग) के परिप्रेक्ष्य में क्या प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित दोनों योजनाओं की लागत में वृद्धि हुई किन्तु एकपुनिया लघु सिंचाई योजना निरस्त कर दी तथा कनियाखेड़ी जलाशय योजना निर्माणाधीन हैं? कृपया औचित्य बताएं?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी हां, जिला सीहोर तहसील इछावर में प्रस्तावित एकपनिया जलाशय दिनांक 18.09.2024 को निरस्त कर दी गई है। पूरक जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं, एकपनिया जलाशय के निरस्तीकरण बावत माननीय राजस्व मंत्री जी, म.प्र. शासन द्वारा नोटशीट नहीं लिखी जाना प्रतिवेदित है। (ग) जी हां, एकपनिया जलाशय का प्रस्तावित कमाण्ड क्षेत्र पार्वती आई.एस.पी. लिंक परियोजना के कमाण्ड क्षेत्र में ओव्हरलेप के कारण परियोजना को निरस्त किया गया। जिला सीहोर तहसील आष्टा अन्तर्गत कान्याखेड़ी जलाशय प्रस्तावित कमाण्ड क्षेत्र अन्य परियोजनाओं के कमाण्ड क्षेत्र में ओव्हरलेप नहीं होने के कारण निर्माणाधीन होना प्रतिवेदित है। एकपनिया परियोजना की प्रारंभिक अनुमानित लागत लगभग राशि रू.1942.22 लाख थी। विभागीय एवं राजस्व अमले द्वारा भू-अर्जन सर्वे उपरान्त परियोजना की लागत लगभग राशि रू.3542.00 लाख की जाना प्रतिवेदित है। पूरक जानकारी संलग्न परिशिष्ट में दर्शित है। (घ) जी हां, परियोजना की लागत में वृद्धि परिलक्षित हुई थी, परन्तु एकपनिया परियोजना का कमाण्ड क्षेत्र आई.एस.पी. पार्वती लिंक परियोजना के कमाण्ड क्षेत्र से ओव्हरलेप होने के कारण निरस्त कर दिया गया एवं कान्याखेड़ी मध्यम परियोजना का कमाण्ड क्षेत्र अन्य किसी परियोजना के कमाण्ड क्षेत्र से ओव्हरलेप नहीं होने के कारण निर्माणाधीन होना प्रतिवेदित है।
परासिया को जिला बनाया जाना
[राजस्व]
85. ( क्र. 2440 ) श्री
सोहनलाल बाल्मीक
: क्या
राजस्व
मंत्री महोदय
यह बताने की
कृपा करेंगे
कि (क) परासिया
को जिला बनाये
जाने के संबंध
में विभाग
द्वारा अभी तक
क्या-क्या
कार्यवाही की
गई है? कार्यवाही
से संबंधित
दस्तावेजों
की प्रमाणित
प्रति उपलब्ध
कराये। (ख)
परासिया
को जिले का
दर्जा प्रदान
किये जाने के
संबंध में प्रश्नकर्ता
द्वारा
माननीय
मुख्यमंत्री
महोदय को (अनुस्मरण
पत्र 02) पत्र
क्र.वि.स./परासिया/127/2025/69 दिनांक 11.02.2025 तथा मान.
करण सिंह
वर्मा मंत्री राजस्व
विभाग को
अनुस्मरण
पत्र 01
पत्र
क्र.वि.स./परासिया/127/2024/853
दिनांक 16.12.2024
एवं श्रीमान
प्रमुख सचिव
महोदय राजस्व
विभाग
अनुस्मरण
पत्र 01
पत्र
क्र.वि.स./परासिया/127/2024/855 दि.16.12.2024
प्रेषित किए
गये थे, जिन
पत्रों पर
विभाग द्वारा
अभी तक क्या कार्यवाही
की गई है और
अगर
कार्यवाही
नहीं की गई तो
उसका क्या
कारण है?
कब
तक कार्यवाही
की जायेगी? (ग) परासिया
को जिला बनाये
जाने से
संबंधित सभी औपचारिकताओं
व कार्यवाही
को विभाग
द्वारा कब तक
पूर्ण करते
हुए परासिया
को जिले का
दर्जा प्रदान
कर दिया
जायेगा?
राजस्व
मंत्री ( श्री
करण सिंह
वर्मा ) : (क) परासिया
को जिला बनाये
जाने के संबंध
में कलेक्टर
छिन्दवाड़ा
से प्रस्ताव
प्राप्त हुआ
है। प्रकरण
आयोग के समक्ष
विचाराधीन है।
समय-सीमा बताया
जाना संभव
नहीं है। (ख) जी
हाँ। कार्यवाही
आयोग के समक्ष
विचाराधीन है।
समय-सीमा बताया
जाना संभव
नहीं है। (ग) उत्तरांश
''ख''
अनुसार।
विभाग अंतर्गत की गई कार्यवाही की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
86. ( क्र. 2457 ) श्रीमती अनुभा मुंजारे : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला बालाघाट अंतर्गत समस्त विद्यालयों में शिक्षकों की नियुक्ति दिनांक से पूर्ण वेतनमान दिये जाने पश्चात् वेतन निर्धारण में उनका वेतन उनके कनिष्ठ से भी कम हो गया है क्यों? (ख) इस विसंगति को दूर करने हेतु क्या मध्यप्रदेश शासन वित्त विभाग वल्लभ भवन मंत्रालय भोपाल अधिसूचना भोपाल दिनांक 28 फरवरी 2009 क्र. एफ-8/2009/नियम/चार के प्रावधान की टिप्पणी क्रमांक 5 तथा 7 का लाभ दिया गया है? (ग) यदि हाँ, तो क्या इसी आधार पर प्राप्त अंतिम वेतन अनुसार पेंशन प्रकरण, पेंशन कार्यालय बालाघाट प्रेषित किया गया है? (घ) यदि नहीं, तो क्यों? इसके लिए कौन जिम्मेदार है तथा जिम्मेदारों पर क्या कार्यवाही की गई है? (ड.) क्या कर्मचारी को वर्तमान में न्यूनतम वेतन दिया जा रहा है अगर हाँ तो वेतन निर्धारण कब तक किया जावेगा एवं वेतन का एरियस कब तक भुगतान किया जावेगा।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) वेतन निर्धारण त्रुटिपूर्ण होने पर सुधार किया जा सकता है। (ख) जी हाँ। (ग) कोष एवं लेखा से अनुमोदन के आधार पर पेंशन प्रकरण तैयार कर पेंशन कार्यालय को प्रस्तुत जाता है। (घ) उत्तरांश "ग" के अनुक्रम में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ड.) उत्तरांश (क), (ख) एवं (ग) अनुसार।
मेंढा जलाशय परियोजना में पम्प हाउस एवं पक्की नहरों का निर्माण
[जल संसाधन]
87. ( क्र. 2458 ) श्री महेन्द्र केशरसिंह चौहान : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बैतूल जिले में ताप्ती नदी पर मेंढ़ा जलाशय परियोजना में जलाशय की उंचाई, जल भराव क्षमता तथा रूपांकित सिंचाई क्षमता कितनी थी, इस जलाशय की उंचाई बढ़ाने हेतु किन-किन जनप्रतिनिधियों द्वारा समय-समय पर किस-किस स्तर पर आवेदन दिये गये? (ख) मेंढ़ा जलाशय की ऊंचाई बढ़ाए जाने से बांध की कुल लागत, जल भराव क्षमता तथा रूपांकित सिंचाई क्षमता में कितनी वृद्धि होनी है? (ग) संशोधित योजना में पानी की लिफ्टिंग हेतु पम्प हाउस पक्की नहरों का निर्माण में कितना व्यय संभावित है, पम्प हाउस एवं पक्की नहरों का निर्माण कब तक किया जाकर किसानों को सिंचाई हेतु पानी उपलब्ध कराया जावेगा?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) बैतूल जिले में ताप्ती नदी पर मेंढा मध्यम परियोजना में जलाशय की ऊँचाई 37.86 मी. जल भराव क्षमता 36.40 घ.मी. तथा रूपाकिंत सिंचाई क्षमता 5,800 हेक्टेयर थी इस परियोजना की ऊँचाई बढ़ाने हेतु जन-प्रतिनिधियों द्वारा आवेदन प्रस्तुत किया जाना प्रतिवेदित है। (ख) बांध की ऊंचाई बढ़ाने पर 10.50 मि.घ.मी. अधिक जल का संग्रहण होगा, जिससे 4,500 हेक्टेयर में रूपांकित सिंचाई क्षमता में वृद्धि होगी। (ग) संशोधित योजना में पानी की लिफ्टिंग हेतु पंप हाउस पक्की नहरों का निर्माण में व्यय 115.47 करोड़ संभावित है। निश्िचत समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
परिवहन विभाग में जीएसटी एवं परमिट टैक्स
[परिवहन]
88. ( क्र. 2462 ) श्री कैलाश कुशवाहा [श्री अनिरुध्द (माधव) मारू] : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश परिवहन विभाग द्वारा ऑनलाईन आवेदन एवं टैक्स फीस के भुगतान पर जो सेवा प्रभार एवं जीएसटी टैक्स जनता से वसूला जा रहा है? वह शासन के किस खाते में जमा किया जा रहा है एवं जीएसटी की रकम किस जीएसटी खाते में जमा की जा रही है क्या मध्यप्रदेश परिवहन विभाग एक सेवा प्रदाता के रूप में जीएसटी में पंजीकृत है? मध्य प्रदेश परिवहन विभाग के जीएसटी खाते नंबरों की जानकारी दी जावें। क्या वर्ष 2022 से अभी तक उपरोक्त वर्णित सेवाओं से कितना सेवा प्रभार एवं जीएसटी जनता से वसूल किया जा रहा है? (ख) क्या मध्यप्रदेश में यात्री वाहन जो अखिल भारतीय पर्यटक परमिट पर अच्छादित है उक्त वाहन का परमिट 5 वर्ष तक वैध है, परंतु प्राधिकार पत्र की एक वर्ष की वैधता पूर्ण हो गई है। प्राधिकारी पत्र के नवीनीकरण न होने पर वाहन परमिट पर माना जायेगा या बिना परमिट माना जायेगा? अथवा वाहन पर टैक्स स्पेयर का लिया जायेगा या अखिल भारतीय पर्यटक परमिट का टैक्स लिया जायेगा? यदि इस प्रकार की वाहन रोड पर चलती हुई पायी जाती है तो परमिट शुदा मान्य किया जायेगा अथवा बिना परमिटशुदा मान्य किया जायेगा?
परिवहन
मंत्री ( श्री
उदय प्रताप
सिंह ) : (क) जी
हाँ, परिवहन
विभाग द्वारा
ऑनलाईन आवेदन
एवं टैक्स फीस
के भुगतान
सेवा प्रभार
एवं जीएसटी
प्राप्त किया
जाता है। उक्त
राशि
मध्यप्रदेश
शासन, परिवहन
विभाग के लेखा
शीर्ष (0041-राजस्व
प्राप्तियॉं) में
जमा की जाती
है। जीएसटी
खाते में राशि
जमा करने
संबंधी कार्यवाही
विभाग द्वारा
प्रचलन में है।
मध्य प्रदेश, परिवहन
विभाग का
जीएसटी खाता
पंजीकृत है। जिसका
पंजीयन नम्बर 23AAAGT1546H1ZG है। जीएसटी पंजीयन
की
छायाप्रति
संलग्न परिशिष्ट अनुसार
है। परिवहन
विभाग की सेवा
प्राप्त करने
हेतु किये
जाने वाले
प्रत्येक
ऑनलाइन आवेदन
पर रू. 63.00
सेवाप्रभार
एवं उस पर रू.11.34 जीएसटी
की राशि तथा
प्रत्येक
मोटरयान कर
जमा करने पर
रू. 27.00
सेवाप्रभार
एवं उस पर रू. 04.86 जीएसटी
की राशि वसूल
की जा रही है। (ख) मध्यप्रदेश
में जो यात्री
वाहन अखिल
भारतीय पर्यटक
परमिट पर
आच्छादित हैं
उक्त वाहन का
परमिट 5
वर्ष तक वैध
है, परंतु
प्राधिकारी पत्र
की एक वर्ष की
वैधता पूर्ण
हो जाने पर प्राधिकारी
पत्र के
नवीनीकरण न
होने की दशा
में उक्त वाहन
यदि संचालित
नहीं किया
जाता है तो उस
पर अखिल
भारतीय
पर्यटक परमिट
का टैक्स न
लिया जाकर
स्पेयर टैक्स
लिया जायेगा। इस
प्रकार की
वाहन रोड पर
चलती हुई पायी
जाती है तो
उसे बिना
परमिट मान्य
किया जाकर
उससे पूर्ण
मोटरयान कर
तथा
नियमानुसार
कर की शास्ति
एवं
निर्धारित
शमन-शुल्क
लिया जायेगा।
परिशिष्ट
- "बीस"
विधानसभा क्षेत्र घट्टिया के अंतर्गत विकसित की जा रही कॉलोनियां
[राजस्व]
89. ( क्र. 2465 ) श्री सतीश मालवीय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र घट्टिया के अंतर्गत जनवरी 2023 से प्रश्न दिनांक तक कितनी कॉलोनियाँ कहाँ-कहाँ और कितने रकबे में विकसित की गयी है? कॉलोनीवार सम्पूर्ण जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में कितनी कॉलोनियों के पूर्णता प्रमाण पत्र जारी हो चुके है? कॉलोनीवार सम्पूर्ण जानकारी उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में बिना कॉलोनाइजर लायसेंस के एवं बिना अन्य अनुमति के कितनी अवैध कॉलोनियाँ कहाँ-कहाँ विकसित की जा रही है? स्थानवार संपूर्ण जानकारी उपलब्ध करावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) :(क) विधानसभा क्षेत्र घट्टिया के अंतर्गत जनवरी 2023 से प्रश्न दिनांक तक कुल 11 कॉलोनियां विकसित की गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट - "अ"अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में 04 कालोनियों के पूर्णता प्रमाण पत्र जारी किये गये है। पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट - "ब" अनुसार। (ग) अनुविभागीय अधिकारी से प्राप्त जानकारी अनुसार कुल 11 अवैध कालोनियां विकसित की गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट - "स" अनुसार।
वन विभाग की कब्जे वाली भूमियों की जानकारी
[राजस्व]
90. ( क्र. 2467 ) श्री अनिरुध्द (माधव) मारू : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) म.प्र. में वन विभाग की भूमियों का राजस्व विभाग के साथ संयुक्त बंदोबस्त अंतिम बार कब हुआ था? (ख) कितनी ऐसी भूमिया है जो राजस्व विभाग में दर्ज होकर वन विभाग के कब्जे में हैं और ऐसी कितनी भूमियों को राजस्व विभाग ने अभी तक अपने कब्जे में वापस किया है और कितनी भूमियों अभी भी वन विभाग के कब्जे में हैं। (ग) क्या राजस्व विभाग वन विभाग की भूमियों का पुनः बंदोबस्त कर अतिरिक्त कब्जे वाली भूमिया वापस अपने कब्जे में लेगा, यदि हाँ, तो उक्त प्रक्रिया कब तक पूर्ण की जावेगी, यदि नहीं, तो राजस्व भूमिया जो वन विभाग के कब्जे में हैं उनका क्या निराकरण किया जावेगा।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) वन विभाग की भूमियों का राजस्व विभाग के साथ संयुक्त बन्दोबस्त नहीं हुआ है। (ख) जिला आगर मालवा:- की तहसील सोयतकला अंतर्गत ग्राम कंवराखेडी के भूमि सर्वे नंबर 288/4 रकबा 0.50 हेक्टेयर एवं ग्राम करकडिया के भूमि सर्वे नंबर 35 रकबा 1.14 हेक्टेयर भूमि में से रकबा 0.06 हेक्टेयर, सर्वे नंबर 36 रकबा 1.55 हेक्टेयर में से रकबा 0.10 हेक्टेयर भूमि राजस्व विभाग में दर्ज है, जिस पर वन विभाग का कब्जा है, जो न्यायालय तहसीलदार सोयतकला के प्रकरण क्रमांक – 0020/अ-70/2024-25 से विचाराधीन है। जिला छतरपुर:-अन्तर्गत कुल 16934.175 हेक्टेयर भूमि राजस्व विभाग में दर्ज होकर वन विभाग के कब्जे में हैं जिसमें से 9.146 हेक्टेयर भूमि राजस्व विभाग ने अपने कब्जे में वापिस किया है शेष 16925.029 हेक्टेयर भूमि अभी भी वन विभाग के कब्जे में है। जिला शहडोल:-अंतर्गत वनमण्डल उत्तर शहडोल में कुल 210 संरक्षित वनखण्ड के 38715.969 हेक्टेयर वनभूमि दर्ज है यह सभी भूमियां वनविभाग के कब्जे में हैं। राजस्व विभाग द्वारा अभी तक अपने कब्जे में वापस नहीं लिया है। जिला अनुपपुर:-वनमण्डल अनूपपुर अंतर्गत 30753.879 हेक्टेयर राजस्व विभाग के नाम दर्ज है एवं वन विभाग के कब्जे में दर्ज है। जिला जबलपुर :-जबलपुर जिले में जबलपुर वनमंडल के अंतर्गत 46258.09 हेo आरक्षित वन,25415.65 हेक्टयर संरक्षित वन एवं 1178.79 हे. नारंगी वन भूमि अधिसूचित है एवं 14162.49 हे. नारंगी वनक्षेत्र की अधिसूचना प्रक्रियाधीन है तथा शासन के निर्देश के पालन में वन विभाग के नियंत्रण में हैI जिला सीधी :-संयुक्त सीमांकन के दौरान 2362.487 हे. कृषि भूमि के पट्टे एवं 99.38 हे. आवासीय पट्टे की भूमि वन सीमा लाइन के अन्दर चिन्हित की गयी है, जिसके निराकरण की कार्यवाही प्रचलन में है। जिला नीमच :-जिला नीमच में लगभग 1710 हेक्टेयर भूमि राजस्व विभाग एवं वन विभाग के मध्य विवाद में हो कर निराकरण की प्रक्रिया की जा रही है। अतः 1710 हेक्टेयर अभी भी राजस्व विभाग में दर्ज है, किन्तु वन विभाग के कब्जे में है। दो नक्शा विहीन ग्रामो में शासकिय भूमि की स्थति स्पष्ट नहीं होने से वन और राजस्व भूमि को लेकर विवाद की स्थति है जिसका क्रमशः निराकरण किया जा रहा है। जिला मण्डला:-जिला अंतर्गत राजस्व विभाग के अभिलेख में दर्ज आरक्षित वन 3421 हे. संरक्षित वन 2318 हे. भूमि वन विभाग के कब्जे में है। राजस्व विभाग अभी तक उपरोक्त भूमि में से कोई भूमि अपने कब्जे में वापस नहीं लिया है। जिला सिवनी:- सिवनी जिला अंतर्गत तहसील सिवनी के 02 ग्राम मोरडोंगरी एवं टिकारी तथा तहसील कुरई के 02 ग्राम हाथीगढ़ एवं पोतलई इस प्रकार कुल 04 ग्रामों की 39 खसरा नम्बरों की भूमियां राजस्व विभाग में दर्ज होकर वन विभाग के कब्जे में है। शेष प्रश्नांश की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। जिला कटनी:- जिले के अंतर्गत अनुभाग कटनी, बहोरीबंद एवं विजयराघवगढ़ की जानकारी निरंक है तथा अनुभाग ढीमरखेड़ा अंतर्गत राजस्व विभाग में दर्ज ग्राम करौंदी प.ह नं. 23 के खसरा नम्बर 1, 3, 5, 6, 8, 11, 14, 18, 22, 23, 25, 20, 30, 31, 33, 34, 35, 38, 41, 45, 51, 53, 54, 56, 57, 58, 59, 62, 66, 74, 83, 273 रकबा क्रमशः 281.11, 0.25, 0.10, 0.20, 2.46, 1.13, 0.24, 0.36, 1.34, 0.06, 1.78, 0.20, 0.39, 0.25, 0.24, 0.21, 2.78, 1.06, 0.57, 0.26, 1.91, 0.05, 0.78, 0.10, 0.30, 16.07, 0.50, 0.06, 0.55, 4.45, 0.11, 13.82 कुल रकवा 334.29 हे भूमि भारतीय वन अधिनियम की धारा 19 तक की कार्य पूर्ण किया जा चुका है। राजपत्र 1962 की अधिसूचना के अनुसार वन विभाग के कब्जे में हैं तथा खसरा नम्बर 2, 9, 69, 4, 7, 10, 12, 13, 15, 16, 17, 19, 24, 20, 21, 27, 28, 29, 32, 36, 42, 44, 46, 37, 39, 43, 40, 50, 47, 48, 49, 60, 65, 67, 63, 68, 71, 73, 70 की कुल भूमि 21.37 हे. शासन की योजना के अंतर्गत कृषि उपयोग हेतु शासकीय पट्टे तथा खसरा नम्बर 52, 55 रकबे सड़क निर्माण होने से वन व्यवस्थापन की प्रक्रिया से मुक्त किया गया है। उक्त ग्राम करौंदी की 21.37 हे. भूमि वन विभाग से वापस ली गयी है। शेष जिलों की जानकारी निरंक है। है। (ग) राजस्व वन सीमा विवाद अंतर्गत माननीय सर्वोच्च नयायालय के निर्देशों के अधीन आवश्यकतानुसार मामले के निकराकरण के प्रावधान है। है। आवश्यक होने पर कार्यवाही की जावेगी।
सात धारा स्थल का पर्यटन स्थल में विकास
[पर्यटन]
91. ( क्र. 2484 ) श्री रजनीश हरवंश सिंह : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी जिला अंतर्गत घाट खरपड़िया के सात धारा स्थल को पर्यटन स्थल घोषित किए जाने हेतु क्षेत्रीय जनप्रतिनिधियों के द्वारा लगातार मांग की जा रही है। यदि हाँ, तो विभाग द्वारा आज दिनांक तक सात धारा स्थल को पर्यटन स्थल घोषित किए जाने हेतु कोई कार्यवाही क्यों नहीं की गई? (ख) क्या धार्मिक एवं प्राकृतिक स्थल सात धारा में पर्यटकों की सुविधा को देखते हुये पक्की सड़क, सीढ़ी निर्माण, सामुदायिक भवन आदि के निर्माण कार्य हेतु कोई प्रस्ताव विभाग के समक्ष विचाराधीन हैं? यदि हाँ, तो बतायें। (ग) उक्त स्थान में विभाग द्वारा क्या-क्या सुविधायें पर्यटकों को दी जा रही हैं व विभाग द्वारा कौन-कौन से निर्माण कार्य कराये गये हैं? पूर्णत: जानकारी देवें।
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) मध्यप्रदेश पर्यटन नीति 2016 यथा संशोधित नीति 2019 में किसी भी स्थल को पर्यटन स्थल घोषित करने का कोई प्रावधान नहीं है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी नहीं। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश (क) एवं (ख) अनुसार।
रतलाम मेडिकल कॉलेज में अनियमितता
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
92. ( क्र. 2486 ) श्री रजनीश हरवंश सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या स्टेट फार्मासिस्ट एसोसिएसन म.प्र. द्वारा अपने पत्र क्रमांक SPAMP/2025/06 भोपाल दिनांक 11/02/2025 के माध्यम से रतलाम मेडिकल कॉलेज से संबद्ध अस्पताल में हो रही अनियमितताओं के संबंध में 11/02/2025 को ईमेल के माध्यम से विभागीय प्रमुख सचिव, आयुक्त एवं संचालक चिकित्सा शिक्षा को पत्र लिखकर उचित कार्यवाही हेतु अवगत कराया गया है। (ख) क्या उक्त पत्र में उल्लेखित जिम्मेदार अधिकारी द्वारा की जा रही मनमानी एवं अधिकारों के दुरूपयोग बारे में अवगत कराते हुए उक्त एसोसिएशन द्वारा संचालनालय स्तर पर समिति बनाकर जांच किए जाने का आग्रह किया गया है? (ग) उपरोक्तानुसार उक्त पत्र पर संचालनालय स्तर पर जांच समिति गठन कब किया गया? समिति में कौन-कौन से सदस्य है? समिति द्वारा वर्तमान अधीक्षक द्वारा जारी अपने चहेतों को चार्ज दिये जाने के आदेशों का परीक्षण एवं रतलाम मेडिकल कॉलेज सेंट्रल स्टोर में वर्ष 2018 से की जा रही खरीदी के संबंध में किन-किन दस्तावेजों का परीक्षण किया गया? कब तक जांच पूर्ण कर दोषियों पर कार्यवाही की जावेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) प्रकरण में अधिष्ठाता, चिकित्सा महाविद्यालय रतलाम से प्रारंभिक रिपोर्ट प्राप्त किये जाने हेतु संचालनालय चिकित्सा शिक्षा द्वारा पत्र क्रमाक 3624/डीएमई/कॉर्पो/2025, दिनांक 08.03.2025 प्रेषित किया गया है। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
गणवेश की आपूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
93. ( क्र. 2502 ) श्री बाला बच्चन : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) KCK इंटरप्राइजेस खण्डवा जिसका GSTIN 23IOSPK9553L1ZZ है द्वारा वर्ष 21-22, 22-23 एवं 23-24 में खण्डवा, बुरहानपुर, बड़वानी एवं नर्मदापुरम जिले में गणवेश सप्लाय एवं अन्य सप्लाई की जानकारी वर्षवार निर्धारित राशि, भुगतान राशि, लंबित राशि, भुगतान दिनांक सहित जिलावार देवें। (ख) फर्म का चयन किस आधार पर किया गया? पूरी चयन प्रक्रिया से संबंधित दस्तावेजों की प्रमाणित प्रतियां वर्षवार, जिलावार देवें। क्या सभी स्थानों पर कोटेशन जमा करने वाली फर्मे समान है? यदि हाँ, तो इस प्रक्रिया में शामिल अधिकारियों के नाम, पदनाम सहित देवें। प्रश्नांश (क) में उल्लेखित फर्म एवं चयन प्रक्रिया में शामिल अन्य सभी फर्मों की प्रश्नांश (क) अवधि अनुसार भरे गये GST रिटर्न की प्रमाणित कापियां भी माहवार, वर्षवार, फर्मवार देवें। (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित जिलों में गणवेश सप्लाई का प्रश्न दिनांक की स्थिति में कितनी फर्मों का कितना भुगतान लंबित है? जिलावार, फर्म नाम, राशि सहित बतावें। इस विलम्ब का कारण देकर बतावें कि यह भुगतान कब तक कर दिया जायेगा? (घ) प्रश्नांश (ख) अनुसार चयन प्रक्रिया में अनियमितता पाई जाती है तो इसके उत्तरदायी अधिकारियों एवं चयनित फर्म पर कब तक कार्यवाही की जाएगी? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) सत्र 2021-22 में गणवेश की राशि छात्र/छात्राओं के खाते में प्रदाय की गई। सत्र 2022-23 एवं 2023-24 में गणवेश प्रदाय की कार्यवाही जिला खण्डवा, बुरहानपुर, बड़वानी एवं नर्मदापुरम में राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन द्वारा की गई। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'A', 'B', 'C' एवं 'D' पर है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'E', 'F' और 'G' पर है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'H' पर है। (घ) चयन प्रक्रिया समूहों द्वारा सामुदायिक उपार्जन नियमावली के दिशा-निर्देश अनुसार की गई है।
भगवान अजयपार जी की मूर्ति की स्थापना
[संस्कृति]
94. ( क्र. 2508 ) श्री ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या दिनांक 27.01.2025 को पन्ना कलेक्ट्रेट सभागार में माननीय प्रभारी मंत्री पन्ना की समीक्षा बैठक में भगवान अजयपार जी की मूर्ति स्थायी रूप से अजयपार मंदिर में रखे जाने हेतु अधीक्षक पुरातत्वविद् द्वारा लिखित रूप से मूर्ति की सुरक्षा व्यवस्था उपलब्ध कराये जाने के संबंध में लेख किया गया था? क्या उक्त संबंध में पुलिस अधीक्षक पन्ना द्वारा अपने पत्र क्रमांक 264 दिनांक 17.02.2025 कलेक्टर पन्ना को सुरक्षा व्यवस्था हेतु लगाई जाने वाली गार्ड के रूकने, पीने के पानी एवं बिजली आदि सुविधाएं उपलब्ध कराने हेतु लेख किया गया है। (ख) यदि हाँ तो उक्त संबंध में क्या कार्यवाही की जा रही है? कब तक कार्यवाही पूर्ण की जाकर भगवान अजयपार जी की मूर्ति स्थापित की जावेगी? समय सीमा बतावें। (ग) पन्ना विधानसभा अंतर्गत प्रश्नकर्ता द्वारा माननीय मुख्यमंत्री जी को प्रेषित कितने पत्रों को कार्यवाही हेतु ''ए'' एवं ''ए'' प्लस सूची में शामिल किया गया है? उक्त में से कितने पत्रों पर कार्यवाही की जा चुकी है? कितने पत्र कार्यवाही हेतु शेष है? (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार कितने पत्र अस्वीकृत हुये हैं? अस्वीकृत होने का क्या कारण है?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी नहीं। यह सही है कि पुलिस अधीक्षक पन्ना द्वारा पत्र क्रमांक 264 दिनांक 17.02.2025 से अजयपाल किला में पुलिस गार्ड के रूकने हेतु गार्ड रूम, पेयजल, बिजली एवं अन्य मूलभूत सुविधाओं को उपलब्ध कराने के लिए कलेक्टर पन्ना को लेख किया गया है। (ख) प्रश्नांश 'क' के उत्तर के प्रकाश में कोई कार्यवाही प्रस्तावित नहीं है। (ग) जी नहीं। विभाग में इस संबंध में ''ए'' एवं ''ए'' प्लस सूची में कोई प्रकरण आज दिनांक तक प्राप्त नहीं हुआ है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश 'ग' अनुसार।
क्षेत्रीय स्वास्थ्य केंद्रों के पदों की पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
95. ( क्र. 2514 ) डॉ. राजेन्द्र पाण्डेय : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जावरा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत शासन/विभाग द्वारा केंद्र/राज्य परिवर्तित विभिन्न योजनाओं के माध्यम से आमजन को सहज सुलभ स्वास्थ्य सेवाएं प्राप्त हो सके, इस हेतु विभिन्न स्वास्थ्य केंद्रों के माध्यम से स्वास्थ्य सेवाओं का संचालन किया जा रहा है? (ख) यदि हाँ, तो विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत सिविल हॉस्पिटल जावरा एवं पिपलोदा हेतु, महिला व बाल चिकित्सालय जावरा हेतु, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र हेतु तथा प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों हेतु कितने कितने पद उपरोक्तानुसार उल्लेखित केंद्रों हेतु पद स्वीकृत होकर किस-किस प्रकार के कुल कितने पद हैं? उन स्वीकृत पदों के अनुसार कुल कितने पदस्थ होकर कार्यरत हैं, कुल कितने पद रिक्त होकर खाली पड़े हुए हैं? केंद्रवार जानकारी दें। (ग) उपरोक्तानुसार उल्लेखित स्वास्थ्य केंद्रों पर शासन/विभाग द्वारा विभागीय नियमानुसार स्वीकृत किस-किस प्रकार के संसाधन उपलब्ध करवाए गए एवं किस-किस प्रकार के संसाधन उपलब्ध करवाए जाएंगे? केंद्रवार जानकारी दें। (घ) जावरा सिविल अस्पताल परिसर में नवीन एन.आर.सी. भवन तथा पुराने महिला चिकित्सालय जावरा को ध्वस्त कर परिसर में स्टाफ क्वार्टर की स्वीकृति के साथ ही प्रश्नकर्ता द्वारा निरंतर क्षेत्रीय स्वास्थ्य केंद्रों की विभिन्न आवश्यकताओं के संबंध में की गई मांग के संबंध में आगामी कार्यवाही कब तक की जा सकेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। (घ) वर्तमान में वित्त विभाग म.प्र शासन द्वारा लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा के लिये पूंजीगत कार्यों हेतु सूचकांक 3 निर्धारित किया गया है। निर्धारित सूचकांक अनुसार वर्तमान में विभाग अंतर्गत बैक ऑफ सेंक्शन ऋणात्मक है, तदानुसार उन्नयन किया जाना संभव नहीं है।
अवैध रूप से शासकीय धन का गबन
[स्कूल शिक्षा]
96. ( क्र. 2559 ) श्री हेमंत सत्यदेव कटारे : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता द्वारा विधान सभा सत्र फरवरी, 2024 में पूछे तारांकित प्रश्न क्र. 1220 की जानकारी में विभाग द्वारा जिले के भिण्ड, लहार एवं मेंहगांव अनुभव अंतर्गत शासकीय धन का संदिग्ध भुगतान होना, कई प्रकरणों में कूट रचित कार्यवाही होने से अपराध पंजीबद्ध कराना व अनुशासनिक कार्यवाही होना लेख किया गया था। (ख) क्या कलेक्टर, जिला भिण्ड के पत्र क्र. क्यू/2-ख/सामान्य/अभिलेख/2024/1030, दिनांक 09.02.2024 द्वारा तत्कालीन जिला शिक्षा अधिकारी श्री एच.एस. तोमर से प्रश्न क्र. 1220 की जानकारी तैयार करने के क्रम में समस्त शासकीय अभिलेखों की फाइलें एवं नस्तियां 48 घंटे में जमा कराने हेतु लिखा गया था? क्या श्री तोमर के उत्तराधिकारी जिला शिक्षा अधिकारी भिण्ड के पत्र क्र.शिकायत/गबन/2024/6345, दिनांक 26.07.2024 द्वारा वरिष्ठ लेखा परीक्षक एवं कलेक्टर को प्रेषित जानकारी में उक्त समस्त शासकीय मूल फाइल श्री तोमर द्वारा वापस नहीं करने हेतु पुलिस थाना भिण्ड में प्राथमिकी दर्ज करने हेतु लिखा गया था? यदि हाँ, तो क्या प्राथमिकी दर्ज करायी गयी? यदि हाँ, तो एफ.आई.आर. की छायाप्रति उपलब्ध करायी जाये। (ग) यदि प्रश्नांश (ख) का उत्तर नहीं है तो क्या कलेक्टर के निर्देश के पालन में श्री तोमर द्वारा उक्त शासकीय अभिलेख नस्तियां लौटा दी गयी? यदि नहीं, तो संबंधित दोषी अधिकारी श्री तोमर के विरूद्ध आज दिनांक तक क्या कार्यवाही की गयी? कब तक कार्यवाही की जायेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। जी हाँ। जी नहीं। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) कलेक्टर जिला भिंड के पत्र क्रमांक क्यु/2-ख/सामान्य/ अभिलेख/2024/1030 दिनांक 09.02.2024 के क्रम में दिये गये उत्तर में श्री हरिभुवन सिंह तोमर द्वारा अपने पास किसी भी फाइलें न होने का लेख किया गया है। श्री हरिभुवन सिंह तोमर तत्कालीन जिला शिक्षा अधिकारी भिंड के विरूद्ध एफ.आई.आर दर्ज करने की कार्यवाही नहीं किये जाने के कारण श्री रामदास मित्तल प्रभारी जिला शिक्षा अधिकारी भिंड को जारी कारण बताओ सूचना पत्र एवं संभागीय सयुंक्त संचालक लोक शिक्षण संभाग ग्वालियर द्वारा प्रकरण में संज्ञान में नहीं लिये जाने के कारण जारी किये गये स्पष्टीकरण की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
शासकीय भूमि पर अवैध निर्माण
[राजस्व]
97. ( क्र. 2560 ) श्री हेमंत सत्यदेव कटारे : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ग्राम सिदगुवां, तहसील व जिला सागर पटवारी हल्का 79, खसरा नं. 706 (बी) की भूमि की वर्ष 2000 से वर्तमान तक की नोईयत की जानकारी अभिलेख अनुसार दी जाये कि उक्त भूमि कब तक शासकीय रही तथा कब निजी दर्ज की गई? अभिलेख की प्रमाणित प्रतियों सहित उपलब्ध करायी जाये। (ख) क्या उक्त सागर के बहरिया चौराहे की शासकीय हाइवे से लगी बेशकीमती भूमि का पट्टा ग्राम बामोरा के सरपंच के परिजन अंकित पुत्र रूद्रप्रताप सिंह ठाकुर के नाम नि 36 (4) पट्टा की गई? यदि हाँ, तो वर्तमान में उक्त भूमि का बाजार मूल्य की जानकारी सहित भूमि का पट्टा देने का आधार क्या रहा की जानकारी उपलब्ध करायी जाये। (ग) क्या उक्त बेशकीमती शासकीय भूमि पर राजनैतिक प्रभाव से नियम विरूद्ध आलीशान विनायक रेसीडेन्सी नाम का होटल का निर्माण कराया जा रहा है? यदि हाँ, तो क्या इसकी जांच कराकर कार्यवाही करायी जायेगी? (घ) तहसील सागर के ही पटवारी हल्का बारछा अंतर्गत ग्राम चिटाई के खसरा नं. 4/2, 27/3, 32/2, 37/1, 25, 2 एवं 3 का अभिलेख अनुसार कुल रकबा, भूमि स्वामी आदि की जानकारी सहित वर्तमान में खसरा नं. 2, 3, 10, 19 पर अन्य द्वारा बेजा कब्जा किया हुआ है? अभिलेख अनुसार बेजा कब्जे की भूमि किसकी है, उसका कुल रकबा कितना है? आदि सहित बेजा कब्जा करने वाले का नाम, पता संबंधी जानकारी दी जाये। (ड.) क्या ग्राम चिटाई के खसरा नं. 2, 3, 10, 19 की सैंकडों एकड़ भूमि पर किये बेजा कब्जा को हटाने हेतु कोई शिकायत प्राप्त हुई अथवा बेजा कब्जा हेतु ग्रामीणों में आक्रोश/असंतोष हैं? यदि हाँ, तो अनधिकृत बेजा कब्जा कब तक हटा दिया जायेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार है। (ख) ग्राम सिदगुवां, तहसील व जिला सागर पटवारी हल्का नंबर 79 स्थित भूमि खसरा नंबर 706 वर्ष 2000 से वर्तमान तक की नोईयत रकवा 0.76 हे. आबादी मध्यप्रदेश शासनके रूप में दर्ज हैं। उक्त भूमि वर्तमान भू-अभिलेखों में दर्ज नोईयत आबादी म.प्र. शासन दर्ज है। अभिलेख पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार है। उक्त भूमि खसरा नंबर 706 में शासन द्वारा चलायी गयी स्वामित्व योजनांतर्गत न्यायालय कलेक्टर सागर के द्वारा भू अधिकार प्रमाण-पत्र प्रदाय किया गया है। जिसका बाजार मूल्य रूपये 36.30, 000-00 अंकन छत्तीस लाख तीस हजार रूपये है। भूमि पर भू-अधिकार प्रमाण-पत्र नियमानुसार प्रदाय किया गया है। (ग) उक्त भूमि पर पूर्व से विनायक रेसीडेंसी नाम का होटल निर्मित है। इसकी जांच कर नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी। (घ) तहसील सागर के पटवारी हल्का बारछा अन्तर्गत ग्राम चिटाई के खसरा नंबर 4/2, 27/3, 32/2, 37/1, 25, 2 एवं 3 का वर्तमान राजस्व अभिलेख अनुसार जानकारी इस प्रकार है:-
ख.नं. |
कुल रकबा हे. में |
भूमि स्वामी का नाम/शास. भूमि की मद |
2 |
1.70 |
म.प्र. शासन वन |
3 |
0.15 |
म.प्र. शासन भू-जल |
4/2 |
13.00 |
सरोज सिंह/भूपेंद्र सिंह |
25 |
1.81 |
काजल सिंह/भूपेंद्र सिंह |
27/3 |
0.58 |
भूपेंद्र सिंह/अमोल सिंह |
32/2 |
2.02 |
भूपेंद्र सिंह/अमोल सिंह |
37/1 |
0.33 |
अविराज सिंह/भूपेंद्र सिंह |
उक्त्त ग्राम चिटाई स्थित भूमि खसरा नंबर 02, 03, 10 तथा 19 के अभिलेख एवं भूमि पर बेजा कब्जा की स्थिति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''स'' अनुसार है। (ड.) उक्त अतिक्रमण के संबंध में आज दिनांक तक कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है और न ही ग्रामीणों में उक्त अतिक्रमण को लेकर कोई आकोश/असंतोष होने की जानकारी प्राप्त हुई है। उक्त अतिक्रमण के संबंध में प्रकरण न्यायालय सागर में विचाराधीन है।
रेत भण्डारण एवं अवैध रेत खदानों पर कार्यवाही
[राजस्व]
98. ( क्र. 2579 ) श्री मधु भगत : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बालाघाट जिले के राजस्व विभाग में सभी विकासखंडों में पदस्थ SDM एवं तहसीलदार द्वारा विगत तीन वर्षों में राजस्व विभाग के अधीनस्थ आने वाले रेत खदान (नदियों) के अवैध उत्खनन को रोकने रेत माफि़याओं पर क्या कार्यवाही की गई? की गई कार्यवाही के दस्तावेज उपलब्ध करावें। साथ ही हो रहे अवैध उत्खनन को लेकर क्या आपके द्वारा जिला कलेक्टर बालाघाट एवं राजस्व विभाग भोपाल को कोई सूचना दी गई? यदि हाँ, तो सूचना के दस्तावेज उपलब्ध करावें। (ख) जिले में आपके विभाग में पदस्थ एस.डी.एम. एवं तहसीलदार द्वारा अवैध रेत के भंडारणों पर जप्ती की कारवाई की गई? जप्त भंडारणों की सूची एवं पंचनामे सहित दस्तावेज उपलब्ध करावें। साथ ही एस.डी.एम. एवं तहसीलदार के माध्यम से स्वीकृत रेत खदानों के किये गये सीमांकन के दस्तावेजों एवं सीमांकन की फोटो जिसमें सीमांकन का प्रतीक चिन्ह दिखाई देता हो लकड़ी या फेंसिंग वॉल या अन्य चीजों से किया गया हो एवं पंचनामे की प्रति उपलब्ध करावें। (ग) विभाग द्वारा जिले में कितने रेत भंडारणों की स्वीकृति विभाग द्वारा दी गई स्वीकृति के नियमावली सहित स्थानवार, नक्शावर, खसरावार पृथक-पृथक सत्यापित प्रतिलिपि सहित दस्तावेज उपलब्ध करावें। साथ ही भंडारणों में लगे साइन बोर्ड की फोटो उपलब्ध करावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। बालाघाट जिले के राजस्व विभाग में सभी विकासखंडों में पदस्थ अनुविभागीय अधिकारी एवं तहसीलदार द्वारा विगत 03 वर्षों में राजस्व विभाग के अधीनस्थ अनुविभाग/तहसील में अधीनस्थ आने वाले खदान (नदियों) के अवैध उत्खनन/परिवहन/भण्डारण के प्रकरणों में निराकरण कलेक्टर बालाघाट द्वारा किया जाता है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार है। साथ ही अवैध उत्खनन के प्रकरण कलेक्टर खनिज विभाग को ही प्रेषित किये जाते है। राजस्व विभाग भोपाल को सूचना दिये जाने हेतु निर्देश नहीं होने से शेष जानकारी निरंक है। (ख) जी हाँ। बालाघाट जिला में एस.डी.एम. एवं तहसीलदार द्वारा अवैध रेत भण्डारण पर की गई जप्ती की कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार है। जिले में 36 रेत खदानों का एस.डी.एम. एवं तहसीलदार के माध्यम से किये गये सीमांकन प्रतिवेदन मय पंचनामा के साथ जानकारी पृथक से संलग्न है। (ग) जी हाँ। जिले में खनिज रेत की कुल 05 भण्डारण अनुज्ञप्ति मध्यप्रदेश राजपत्र भोपाल दिनांक 2019 (खनन/परिवहन/भण्डारण तथा व्यापार) मध्यप्रदेश राज भोपाल दिनांक 08-04-2022 के नियम 14, 17 के प्रावधान एवं मध्यप्रदेश राजपत्र भोपाल दिनांक 26-05-2023 के नियम 18 के उपनियम 6 के प्रावधानों के तहत स्वीकृत किये गये क्षेत्र का स्थानवार, नक्शावार, खसरावार एवं साइन बोर्ड की फोटो सहित विवरण परिशिष्ट पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' अनुसार है।
ओव्हर ब्रिज पहुंच मार्ग हेतु सीमांकन
[राजस्व]
99. ( क्र. 2590 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ओव्हर ब्रिज के पहुंच मार्ग निर्माण के लिए नगर पालिका नागदा को भूमि प्रदान करने हेतु मण्डल कार्यालय रतलाम पश्चिम रेल्वे द्वारा वरिष्ठ मण्डल इंजीनियर (सम.) रतलाम के संख्या कार्य 338/6/भाग-3 दिनांक 19/11/2012 को प्रेषित पत्र के द्वारा रेल भूमि का संयुक्त निरीक्षण/सीमांकन राजस्व अधिकारियों व नगर पालिका नागदा व रेल्वे के अधिकारियों द्वारा दिनांक 20/11/2012 को किया गया था? यदि हाँ, तो सीमांकन/नक्शा रिपोर्ट, पंचनामा, जारी सूचना पत्र, प्रतिवेदन, प्रोसिडिंग, फील्ड बुक सहित प्रतिवेदन की छायाप्रति उपलब्ध करावें। (ख) नागदा रेल्वे ओव्हर ब्रिज पहुंच मार्ग के निर्माण हेतु पाडल्याकलां भूमि सर्वे क्र. 410, 492, 609, 604, 492/657, 608 आदि का सीमांकन राजस्व विभाग के अधिकारी, तहसीलदार, पटवारी, राजस्व निरीक्षक और रेल्वे विभाग के निर्माण निरीक्षक व मुख्य निर्माण निरीक्षक द्वारा दिनांक 23/09/1996 व दिनांक 01/10/1996 को किया गया था? यदि हाँ, तो सीमांकन/नक्शा रिपोर्ट, पंचनामा, जारी सूचना पत्र, प्रतिवेदन, प्रोसिडिंग, फिल्ड बुक सहित प्रतिवेदन की छायाप्रति उपलब्ध करावें। (ग) पत्र क्र. 3410/ राजस्व-एक/उज्जैन/2023 उज्जैन दिनांक 12/07/2023 उपायुक्त (राजस्व) उज्जैन संभाग उज्जैन व कलेक्टर उज्जैन जन-सुनवाई क्र. 48 दिनांक 26/12/2023 पर कलेक्टर उज्जैन द्वारा क्या कार्यवाही की गई है? प्रतिवेदन सहित जानकारी उपलब्ध करावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) मण्डल कार्यालय रतलाम पश्चिम रेल्वे द्वारा वरिष्ठ मण्डल इंजीनियर (सम.) रतलाम के संख्या कार्य 338/6/भाग-3 दिनांक 19/11/2012 को प्रेषित पत्र के क्रम में राजस्व वर्ष 2012-13 के दायरा पंजी कि जांच की गई। दायरे में उक्त प्रश्नांश के संबंध में कोई सीमांकन प्रकरण दर्ज नहीं होने से सीमांकन संबंधी दस्तावेज कार्यालय में उपलब्ध नहीं है। (ख) नागदा रेल्वे ओव्हर ब्रिज पहुंच मार्ग के निर्माण हेतु अधिग्रहित की गई भूमि के भू-अर्जन प्रकरण का अवलोकन किया गया। प्रकरण में संलग्न सीमांकन प्रतिवेदन अनुसार दिनांक 19.06.1996 को भूमि सर्वे क्र. 442, 450/19, 450/20/1, 449/1, 449/2, 449/3, 449/4, 449/7, 449/8 व 1211, 1212/1, 1212/2, 1212/3, 1214/1, 1219 का सीमांकन किया गया। सीमांकन संबंधित दस्तावेज संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। भू-अर्जन प्रकरण में प्रश्न में उल्लेखित ग्राम पाडल्याकलां स्थित भूमि सर्वे क्र. 410, 492, 609, 604, 4921657, 608 का भू-अर्जन नहीं हुआ है एवं उक्त सर्वे नंबरों के संबंध में सीमांकन संबंधी कोई दस्तावेज संलग्न नहीं है। (ग) कार्यालयीन पृ.क्र. 1398-1406/शिकायत दिनांक 13.07.2023 द्वारा अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) उज्जैन ग्रामीण/नागदा/तराना/ महिदपुर/घटिट्या एवं खाचरोद को आवश्यक कार्यवाही हेतु भेजा गया है।
जिला शिक्षा केंद्र मंडला के छात्रावासों में वार्डन की नियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
100. ( क्र. 2597 ) श्री नारायण सिंह पट्टा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला शिक्षा केंद्र मंडला अंतर्गत समस्त 15 छात्रावासों में पुराने वार्डन हटाकर नए वार्डनों की नियुक्ति की जानी थी? यदि हाँ, तो केवल 12 छात्रावासों में ही नवीन नियुक्ति क्यों की गई है? शेष 3 में नवीन नियुक्ति नहीं करने के क्या कारण हैं? इसके लिए कौन दोषी है? उसके विरुद्ध क्या कार्यवाही की जाएगी? (ख) क्या नेताजी सुभाषचंद्र बोस बालिका छात्रावास भैंसवाही क्रमांक 1 व क्रमांक 2 एक ही भवन में संचालित हैं? दो अलग-अलग छात्रावास अलग-अलग स्थानों में संचालित नहीं करने के क्या कारण हैं? कब तक अलग संचालन किया जायेगा? वर्तमान में कौन-कौन से छात्रावास भवन विहीन हैं, इनके भवन निर्माण हेतु क्या कार्यवाही की जा रही है? अप्रैल 2022 से पुराने व जर्जर भवनों के सुधार व मरम्मत में कितनी राशि कहाँ-कहाँ खर्च की गई है? वर्तमान में किन-किन भवनों में मरम्मत की आवश्यकता हैं और इसके लिए क्या कार्यवाही की जा रही है? (ग) मंडला के ए.पी.सी. बालिका शिक्षा शेषमणि गौतम की अनियमित कार्यप्रणाली के विरुद्ध आवेदक सुभाष पांडे द्वारा की गई शिकायत में क्या कार्यवाही की गई? क्या इस सम्बन्ध में कोई जाँच की गई है? यदि हाँ, तो जाँच प्रतिवेदन उपलब्ध कराएं। यदि नहीं, तो कब तक जाँच करवाई जाएगी? यदि नहीं, करवाई जाएगी तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। शेष 03 छात्रावासों में से 02 में चयनित वार्डनों के द्वारा कार्य करने में असमर्थता का लिखित कथन करते हुये कार्यभार गृहण नहीं किया गया है तथा 01 में चयनित वार्डन के विरूद्ध पूर्व में लगे हुये अभियोग के कारण जेण्डर कोर कमेटी द्वारा आपत्ति दर्ज की गयी। इसलिए उसका चयन कोर कमेटी द्वारा निरस्त कर दिया गया। तीनों छात्रावासों में वार्डन की प्रतीक्षा सूची में कोई उम्मीदवार न होने के कारण उक्त 03 छात्रावासों में वार्डन की नियुक्ति नहीं हो पायी है। (ख) जी हाँ। दोनों छात्रावास के स्वयं के भवन न होने के कारण एक ही भवन में संचालित है। वर्तमान में बालिका छात्रावास आरोली, जारगी एवं भैंसवाही क्रमांक 2 स्वयं के भवन नहीं हैं। भवन निर्माण हेतु कार्यवाही बजट की उपलब्धता के आधार पर की जाती है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'अ' एवं 'ब' पर है। (ग) उक्त शिकायत के संबंध में कलेक्टर मण्डला के पत्र क्रमांक 6072 दिनांक 07.03.2025 द्वारा जांच समिति गठित की जा चुकी है तथा जांच प्रक्रियाधीन है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'स' पर है।
अपर बुढ़नेर बाँध परियोजना
[जल संसाधन]
101. ( क्र. 2598 ) श्री नारायण सिंह पट्टा : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मंडला एवं डिण्डौरी सम्पूर्ण जिले भारतीय संविधान के अनुच्छेद 244 (1) में वर्णित 5वीं अनुसूची के जिले घोषित है? (ख) क्या मंडला और डिण्डौरी जिले में विभाग द्वारा परियोजना "अपर बुढ़नेर वृहद बांध रियोजना" का निर्माण कार्य अथवा अनुबंध किया गया है? यदि हाँ, तो अब तक किन-किन फर्म/कम्पनियों/ठेकेदारों से अनुबंध किया गया है, अनुबंध व कार्यादेश की प्रतियाँ उपलब्ध कराएं? पूर्व के ठेकेदार/कम्पनी द्वारा किस दर पर कार्य लिया गया था? उसके द्वारा कार्य छोड़ने का क्या कारण है? उसके विरुद्ध क्या कार्यवाही की गई? नवीन कम्पनी/ठेकेदार द्वारा किस दर पर कार्य लिया गया है? (ग) क्या "अपर बुढ़नेर वृहद बांध परियोजना" में जनजातियों की पारंपरिक प्राकृतिक सम्पदा (जल, जंगल, जमीन) का अतिक्रमण हो रहा है? इस सम्बन्ध में विभाग द्वारा अब तक क्या-क्या कार्यवाही की गई है? (घ) क्या 5वीं अनुसूचित जिले मंडला व डिण्डौरी के"अपर बुढ़नेर वृहद बांध परियोजना" के सर्वेक्षण, अनुबंध, निर्माण के पूर्व म.प्र. पंचायती राज अधिनियम 2022 (PESA कानून) और म.प्र. वन मान्यता कानून 2006 के प्रावधानों के अनुसार क्या ग्राम सभा की पूर्व अनुमति ली गई? अनुमतियों की प्रतियां उपलब्ध करावें। (ङ) क्या प्रश्नांकित परियोजना पूर्व में निरस्त की जा चुकी थी? निरस्त किए जाने के कारणों से अवगत करवाएं।
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। विभाग द्वारा अपर बुढ़नेर परियोजना के निर्माण हेतु निविदा की कार्यवाही पश्चात ठेकेदार पी.एम.पी.एल. अपर बुढ़नेर जे.व्ही. (पावर मेक प्रोजेक्ट लिमिटेड हैदराबाद, तेलंगाना लीड पार्टनर एवं एच.ई.एस. इन्फ्रा लिमिटेड हैदराबाद, तेलंगाना का संयुक्त उपक्रम) से दिनांक 13/03/2024 को अनुबंध किया गया है। अनुबंध की प्रति पुस्तकालय में रखे ''परिशिष्ट-1'' अनुसार है। अपर बुढ़नेर परियोजना के अनुबंध के पूर्व निविदा के आमंत्रण (टर्न की आधार पर) में एकल निविदाकार रावत - आर.के. इन्फ्रा - असवाद (जे.व्ही.) (मेसर्स रावत एसोसिएट्स बुलन्दशहर (51%) मेसर्स आर.के. इन्फ्राकार्प प्रा.लि. हैदराबाद (28%) एवं मेसर्स असवाद कन्स्ट्रक्शन कम्पनी लि. भोपाल (21%) का संयुक्त उपक्रम) निवासी बंगला नं. 1 सेक्टर-ई सैफिया कॉलेज गेट नं. 2 कोहफिजा भोपाल की निविदा 16 प्रतिशत कम दर पर निविदा में निहित प्रावधानों एवं शर्तों के अनुसार दिनांक 30/12/2022 को स्वीकृत की गई थी। निविदाकार द्वारा निविदा स्वीकृति पश्चात समय-सीमा में अनुबंध नहीं करने पर निविदाकार द्वारा निविदा में जमा बयाने की राशि (EMD) 50 लाख रू. राजसात कर निविदाकार को नियमानुसार काली सूची में डालने की कार्यवाही की गई थी। परियोजना के निर्माण हेतु पुनः निविदा की कार्यवाही के पश्चात खुली स्पर्धा के माध्यम से पी.एम.पी.एल. अपर बुढ़नेर जे.व्ही. से निविदा राशि रू. 62869.29 लाख से 03.51 प्रतिशत कम दर पर राशि रू. 60662.57 लाख का अनुबंध किया गया है। (ग) जी नहीं। अपर बुढ़नेर बांध परियोजना में जनजातियों की पांरपरिक प्राकृति संपदा (जल, जंगल, जमीन) को यथा स्थिति बनाये रखने को विभाग कटिबद्ध है। डी.पी.आर. एवं विस्तृत सर्वे रिपोर्ट पुस्तकालय में रखे ''परिशिष्ट -2'' एवं ''3'' अनुसार है। (घ) जी नहीं। शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता । (ड.) जी नहीं। शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता ।
सरकारी अस्पतालों में पदस्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
102. ( क्र. 2626 ) श्री विजय रेवनाथ चौरे : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सौसर विधानसभा के सरकारी अस्पतालों में 1. एनेस्थिसिया विशेषज्ञ 2. मेडिसिन विशेषज्ञ 3, स्त्री रोग विशेषज्ञ 4. अस्थि रोग विशेषज्ञ 5. शिशु रोग विशेषज्ञ 6. पैथोलॉजिस्ट 7. रेडियोलॉजिस्ट 8. शल्य क्रिया विशेषज्ञ 9. क्षय रोग विशेषज्ञ 10. दन्त रोग विशेषज्ञ 11. मानसिक रोग विशेषज्ञ और 12. चर्मरोग विशेषज्ञ के अलग-अलग, कितने-कितने पद स्वीकृत हैं? (ख) उपरोक्त में कितने-कितने पदों पर विशेषज्ञ कार्यरत हैं और कितने-कितने पद रिक्त हैं? (ग) राज्य सरकार रिक्त पदों को भरने के लिए क्या कार्यवाही कर रही है और इन्हें कब तक भरा जायेगा?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) राज्य शासन द्वारा नवीन राज्य स्तरीय मानक वर्ष 2024 के तहत वर्तमान में संस्थावार स्वीकृत पदों का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग के माध्यम से पदपूर्ति की कार्यवाही प्रचलन में है। (ग) पदपूर्ति एक निरंतर प्रक्रिया है, निश्चित समया-सीमा बताई जाना संभव नहीं है।
डूब में आने के कारण ग्रामवासियों में असंतोष
[जल संसाधन]
103. ( क्र. 2663 ) श्री कैलाश कुशवाहा : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शिवपुरी तथा श्योपुर जिले में अत्यधिक वर्षा होने से ग्राम बूढ़दा तहसील बैराड़ (शिवपुरी) में अपर ककेटो बांध में FTL लेवल 370 में दिनांक 02.09.2018 तक 369.70 FTL पानी भरने से ग्राम बूढ़दा तीनों तरफ से जलमग्न हो गया है, जिससे लोगों का आवागमन, दैनिक कार्य, सुविधाएं एवं ग्राम का विद्युतीकरण प्रभावित हुआ है? उक्त ग्राम डूब में आने के कारण ग्राम में कोई विकास कार्य स्वीकृत नहीं किये गये हैं, ग्राम बूढ़दा डूब में आने के कारण भूमि का मुआवजा कम लोगों को दिया गया है तथा जमीन अधिक अधिग्रहण की गयी है। उक्त कारण से ग्रामवासियों में असंतोष है, जानकारी दी जावे। (ख) क्या शिवपुरी जिले की तहसील बैराड़ एवं श्योपुर जिले की विजयपुर तहसील में जल संसाधन द्वारा निर्मित अपर ककेटो परियोजना से प्रभावित ग्राम बूढ़दा तहसील बैराड़ जिला शिवपुरी में अपर ककेटो बांध के FTL तक भराव के कारण डूब जैसी स्थिति निर्मित हो रही है, इस प्रकार के प्रकरणों के संबंध में कोई स्पष्ट दिशा-निर्देश नहीं होने से शासन स्तर से कलेक्टर जिला शिवपुरी द्वारा सचिव जल संसाधन विभाग मंत्रालय वल्लभ भवन भोपाल से पत्र क्रमांक/भू-अर्जन/2025/344 दिनांक 13.01.2025 से नीतिगत निर्णय लेने हेतु एवं पत्र क्रमांक/भू-अर्जन/2025/341 दिनांक 13.01.2025 से अर्जन की मुआवजा राशि प्रदाय करने बाबत् अनुरोध किया गया है, उक्त पत्रों के संबंध में आज दिनांक तक क्या कार्यवाही हुई?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी हाँ, ग्राम बूढ़दा तहसील बैराड़ (शिवपुरी) में अपर ककेटो बांध में FTL लेवल 370 में दिनांक 02.09.2018 तक 369.70 RL तक पानी भरने से ग्राम बूढ़दा, तीनों तरफ से जलमग्न हो जाना प्रतिवेदित है। ग्राम बूढ़दा की वर्ष 2018 से पहले FTL तक बांध भरने से 100.48 हेक्टेयर भूमि का अधिग्रहण कर मुआवजा दिया गया परंतु 2018 में FTL 370.00 मी. तक बांध के भरने के उपरांत डूब में आने वाली 02.42 हेक्टेयर भूमि का मुआवजा देना शेष है जो कि प्रक्रियाधीन है। (ख) जी नहीं, यह कहना गलत है कि डूब जैसी स्थिति निर्मित हुयी है। कलेक्टर शिवपुरी के पत्र के संदर्भ में प्रकरण परीक्षणाधीन होना प्रतिवेदित है।
अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही
[राजस्व]
104. ( क्र. 2678 ) श्री आरिफ मसूद : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कार्यालय तहसीलदार, नजूल शहर वृत्त भोपाल द्वारा कार्यालय नगर पालिक निगम (भवन अनुज्ञा शाखा शाहपुरा) भोपाल का पत्र क्र. 1272/भअशा/2025 भोपाल दिनांक 17/02/2025 के परिप्रेक्ष्य में जारी पत्र क्र.1457/रीडर/2025 दिनांक 17/02/2025 के संबंध में राजस्व निरीक्षक द्वारा शासकीय भूमि पर अवैध निर्माण संबंधी अतिक्रमण रिपोर्ट सहित समस्त दस्तावेज की प्रति उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में क्या कर्यालय तहसीलदार नजूल शहर वृत्त भोपाल द्वारा अनावेदक एहसान फारूकी एवं मुग्रीस फारूकी को दस्तावेज उपलब्ध कराए जाने संबंधी कोई नोटिस/पत्र नहीं दिया गया? यदि नहीं, तो अतिक्रमणकारियों को दिए गए नोटिस/पत्र की प्रति उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में क्या कार्यालय नगर पालिक निगम भवन अनुज्ञा शाखा से दिनांक 17/02/2025 को पत्र प्राप्ति के बाद ही अतिक्रमणकारियों को बगैर नोटिस दिए ही दो दिवस यानि दिनांक 19/02/2025 को ही राजस्व निरीक्षक को अतिक्रमण हटाने के लिए की जा रही कार्यवाही में सम्मिलत होने के लिए आदेश दिया गया? यदि हाँ, तो आदेश की प्रति उपलब्ध करावें। (घ) प्रश्नांश (ग) के परिप्रेक्ष्य में क्या माननीय सर्वोच्च न्यायालय की रिट पिटीशन (सिविल) 295/2022, रिट पिटीशन (क्रिमिनल) 162/2022, रिट पिटीशन (सिविल) 328/2022 के आदेश दिनांक 13/11/2024 का उल्लंघन है? यदि हाँ, तो इसके लिए कौन जिम्मेदार है और उस पर क्या कार्यवाही की जाएगी? यदि नहीं, तो क्यों?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ। कार्यालय तहसीलदार नजूल शहर वृत्त द्वारा अनावेदकगण को कोई नोटिस/पत्र दिया गया। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता है। (ग) प्रश्नांश (ग) के संबंध में कार्यालय नगर पालिका निगम (भवन अनुज्ञा शाखा शाहपुरा) भोपाल का पत्र क्रमांक 1272/मऊशा/2025 भोपाल दिनांक 17/02/2025 मध्यप्रदेश नगर पालिका निगम अधिनियम 1956 की धारा 307 (2) इस संदर्भ में कार्यालय द्वारा राजस्व निरीक्षक को मौके पर उपस्थित होने हेतु लेख किया गया था। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
सेवानिवृत्त शिक्षकों के अर्जित/समर्पित अवकाश का नगदीकरण
[स्कूल शिक्षा]
105. ( क्र. 2679 ) श्री विवेक विक्की पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अधीनस्थ स्कूल शिक्षा विभाग में सेवानिवृत्ति उपरांत पेंशनर्स शिक्षकों के अर्जित/समर्पित अवकाश का बिल एक बार में ही पारित किए जाने का प्रावधान है? यदि हाँ, तो क्या सेवानिवृत्त शिक्षकों को आहरण एवं भुगतान एक बार में ही होगा? (ख) जिला शिक्षा अधिकारी बालाघाट द्वारा सेवानिवृत्त शिक्षकों के अर्जित/समर्पित अवकाश के नगदीकरण एवं भुगतान की कार्योत्तर स्वीकृति एवं अनुमोदन हेतु आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय भोपाल को प्रस्ताव एवं मय नस्ती भेजा गया है? यदि हाँ, तो आज दिनांक तक अनुमोदन एवं स्वीकृति की कार्यवाही क्यों नहीं की गई? स्वीकृति में क्या तकनीकी समस्याएं उत्पन्न हो रही हैं? संपूर्ण विवरण सहित अवगत कराएं। अर्जित/समर्पित अवकाश की कब तक स्वीकृति प्रदान कर दी जाएगी? समय-सीमा बताएं। (ग) प्रश्नांश (ख) में शिक्षकों के अर्जित/समर्पित अवकाश के नगदीकरण में विलंब के लिए कौन-कौन अधिकारी/कर्मचारी जिम्मेदार हैं एवं उन पर क्या अनुशासनात्मक कार्यवाही कब तक की जाएगी? समय-सीमा सहित अवगत कराएं। (घ) सेवानिवृत्त शिक्षकों की सेवा पुस्तिका में अंकित आहरण वितरण अधिकारी के कार्योत्तर प्रमाणीकरण के पश्चात भी जिला कोषालय से अतिरिक्त प्रमाण-पत्र देना आवश्यक है? यदि नहीं, तो विभाग द्वारा सेवानिवृत्त शिक्षकों को इस हेतु क्यों अनावश्यक परेशान कर जिला कोषालय के चक्कर लगाने मजबूर किया जा रहा है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) जी हाँ। बालाघाट जिले से प्राप्त 52 लोक-सेवकों के प्रस्ताव के अनुसार संचालनालय के आदेश दि 10.3.25 द्वारा अर्जित अवकाश संचयन की स्वीकृति प्रदान की गई है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) उत्तरांश ''ख'' के अनुक्रम में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
टैगोर कल्चरल कॉम्प्लेक्स योजना
[संस्कृति]
106. ( क्र. 2684 ) श्रीमती अर्चना चिटनीस : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बुरहानपुर के लिए टैगोर कल्चरल कॉम्प्लेक्स योजना स्वीकृत की गई थी? यदि हाँ, तो योजना की स्वीकृति वर्ष, स्वीकृत राशि, प्रश्न दिनांक तक प्राप्त आवंटन के विरूद्ध कितनी राशि का व्यय किया? योजना पूर्णता अवधि, कार्य एजेंसी, योजना का पूर्णता अवधि से अवगत कराएं। क्या योजना के पूर्णता की समय-सीमा समाप्त हो चुकी है? यदि हाँ, तो योजना की प्रश्न दिनांक तक की वर्तमान स्थिति से अवगत कराएं। (ख) क्या योजना पूर्ण करने के लिए किन-किन अधिकारियों के उत्तर दायित्व निश्चित किए गए है? नाम व पद उपलब्ध कराएं। यदि हाँ, तो इनके द्वारा कार्य स्थल पर उपस्थित होकर निरीक्षण कर कार्य पूर्ण करने हेतु क्या कार्यवाही सुनिश्चित की गई? (ग) क्या योजना पूर्ण करने हेतु प्राप्त आवंटन के विरूद्ध निर्माण की शेष राशि प्राप्त करने हेतु विभाग द्वारा किस प्रकार की कार्यवाही की गई? यदि हाँ, तो पूर्ण कार्यवाही विवरण उपलब्ध कराएं। क्या विभाग योजना को पूर्ण करने हेतु कोई समय निश्चित करेगा? यदि नहीं, तो कारण स्पष्ट करें। (घ) क्या महत्वाकांक्षी टैगोर कल्चरल कॉम्प्लेक्स योजना के निर्माण में आ रही समस्याओं के निराकरण के लिए अधिकारियों के साथ बुरहानपुर के भ्रमण हेतु कोई कार्यक्रम निर्धारित करेगा? यदि हाँ, तो क्या विभाग कार्यक्रम हेतु समय-सीमा निश्चित करेगा?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी नहीं। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) से (घ) उत्तरांश 'क' अनुसार।
श्री गुरू गोविन्द सिंह मेमो. म्यूजियम भवन निर्माण की योजना
[संस्कृति]
107. ( क्र. 2685 ) श्रीमती अर्चना चिटनीस : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बुरहानपुर हेतु श्री गुरू गोविन्द सिंह मेमो. म्यूजियम भवन निर्माण योजना स्वीकृत की थी? यदि हाँ, तो निर्माण स्वीकृति वर्ष, स्वीकृत राशि, प्रश्न दिनांक तक प्राप्त आवंटन के विरूद्ध कितनी राशि का व्यय किया, प्राप्त आवंटन के विरूद्ध कितनी राशि किस विभाग के पास शेष है? योजनापूर्णता अवधि, कार्य एजेन्सी, निर्माण की पूर्णता अवधि से अवगत कराएं। क्या निर्माण के पूर्णता की समय-सीमा समाप्त हो चुकी है? यदि हाँ, तो योजना की प्रश्न दिनांक तक की वर्तमान स्थिति से अवगत कराएं। (ख) क्या योजना पूर्ण करने हेतु अधिकारियों के उत्तर दायित्व निश्चित किए है? नाम व पद नाम उपलब्ध कराएं। यदि हाँ, तो इन अधिकारियों द्वारा कार्यस्थल पर उपस्थित होकर निरीक्षण कर कार्य पूर्ण करने हेतु क्या कार्यवाही सुनिश्चित की गई? (ग) क्या योजना पूर्ण करने हेतु प्राप्त आवंटन के विरूद्ध निर्माण की शेष राशि प्राप्त करने हेतु विभाग द्वारा किस प्रकार की कार्यवाही की गई? यदि हाँ, तो पूर्ण कार्यवाही विवरण उपलब्ध कराएं। क्या विभाग योजना को पूर्ण करने हेतु कोई समय-सीमा निश्चित करेगा? (घ) क्या महत्वाकांक्षी श्री गुरूगोविन्द सिंह मेमो. म्यूजियम के निर्माण में आ रही समस्याओं के निराकरण हेतु अधिकारियों के साथ बुरहानपुर के भ्रमण हेतु कोई कार्यक्रम निर्धारित करेगा? यदि हाँ, तो क्या विभाग कार्यक्रम हेतु समय-सीमा निश्चित करेगा?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ, निर्माण योजना की स्वीकृत राशि रूपये 17.06 करोड़ है तथा संस्कृति मंत्रालय भारत सरकार से रू. 15.39 करोड़ की राशि स्वीकृत है, जिसमें प्राप्त प्रथम किश्त के रूप में अनुदान राशि रू. 7, 69, 50, 000/- है, जिसके विरूद्ध प्राप्त संपूर्ण केन्द्रीय राशि एवं राज्यांश की राशि रू. 1, 82, 24, 000/- का व्यय किया गया है। कोई राशि शेष नहीं है। भारत सरकार से द्वितीय किश्त प्राप्त होने के उपरांत योजना पूर्ण होने में लगभग एक वर्ष की अवधि संभावित है। कार्य एजेन्सी मध्यप्रदेश राज्य पर्यटन विकास निगम मर्यादित भोपाल है। (ख) कार्य एजेन्सी मध्यप्रदेश राज्य पर्यटन विकास निगम मर्यादित भोपाल द्वारा संग्रहालय निर्माण कार्य कराया जा रहा है। कार्यपालन यंत्री मध्यप्रदेश पर्यटन विकास निगम द्वारा उक्त कार्यों का निरीक्षण कर कार्य पूर्ण कराने की कार्यवाही की गयी है। (ग) योजना को पूर्ण करने के लिए संस्कृति मंत्रालय भारत सरकार से द्वितीय किश्त प्राप्त करने के लिए निरंतर पत्राचार किया जा रहा है। संस्कृति मंत्रालय, भारत सरकार से शीघ्र ही राशि प्राप्त होने की आशा है। राशि प्राप्ति के आधार पर ही कार्य पूर्ण किया जा सकता है। (घ) जी हाँ, समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
ग्रामों एवं मजरो-टोलों को आबादी घोषित किया जाना
[राजस्व]
108. ( क्र. 2693 ) श्री साहब सिंह गुर्जर : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा ऐसे ग्रामों/मजरो/टोलों को आबादी घोषित किये जाने के संबंध में शासन का क्या नियम है जिसमें विगत कई वर्षों से ग्रामीण जन निवास कर रहे हैं परन्तु प्रश्नांकित दिनांक तक उक्त ग्राम आबादी घोषित नहीं हो पाये? नियम बतावें, नियम की प्रति उपलब्ध करावें। (ख) विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत ऐसे कौन-कौन से मजरे, टोले एवं ग्राम है जिनको अभी आबादी घोषित नहीं किया गया है? सूची उपलब्ध करावें। विकासखण्ड घाटीगांव के ग्राम निरावली के ओड़ो का पुरा एवं नटों का पुरा में वर्षों से कई परिवार निवासरत है परन्तु आबादी घोषित न होने के कारण वे शासन की मूलभूत योजनाओं एवं विकास कार्यों से वंचित हैं, उक्त ग्रामों को आबादी घोषित करने के संबंध में शासन की क्या प्रक्रिया है? आबादी कब तक घोषित कर दिया जावेगा? समय-सीमा बतावें। (ग) विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत कुल 36 ग्राम विशेष क्षेत्र प्राधिकरण (साडा) में आने के कारण उक्त ग्राम आबादी घोषित नहीं है जिससे उन ग्रामों में मूलभूत सुविधाओं जैसे सड़क, पानी, बिजली का अभाव है तथा उक्त ग्रामों में ग्रामीण विकास योजनाओं के विकास कार्य भी नहीं हो पा रहे है। उक्त ग्रामों को आबादी घोषित किये जाने के संबंध में शासन कब तक निर्णय लेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) मध्यप्रदेश भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 243 में आबादी घोषित किये जाने का प्रावधान है, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। जिला ग्वालियर में आबादी घोषित किये जाने हेतु कोई भी प्रस्ताव लंबित नहीं है। (ख) आबादी घोषित किये जाने हेतु कलेक्टर न्यायालय में कोई भी प्रकरण लंबित नहीं है। विधानसभा क्षेत्र-14 ग्वालियर ग्रामीण क्षेत्र के अन्तर्गत ग्राम निरावली के ओडो का पुरा जो सर्वे क्रमांक 921, 935, 937, के भाग में बसा हुआ है, उक्त भूमि विशेष क्षेत्र विकास प्राधिकरण काउन्टर मैगनेट सिटी के नाम दर्ज है इसी प्रकार नटो का पुरा ग्राम बरौआ, नुराबाद की शासकीय भूमि पर बसा हुआ है। ग्राम बरौआ, नूराबाद वर्तमान में नगर निगम क्षेत्र अन्तर्गत आता है। जहां आबादी क्षेत्र नहीं होता है। (ग) आबादी घोषित किये जाने का मूलभूत सुविधाओं से कोई प्रत्यक्ष संबंध नहीं है।
नवगठित जिले में कलेक्ट्रेट एवं पुलिस अधीक्षक कार्यालयों के प्रस्तावित स्थान
[राजस्व]
109. ( क्र. 2700 ) डॉ. राजेन्द्र कुमार सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या नवगठित जिला मैहर में मैहर विधानसभा क्षेत्र की 01 ब्लॉक एवं अमरपाटन विधानसभा के 02 ब्लॉक शामिल है? अगर हाँ तो क्या जिले का बड़ा हिस्सा भू-भाग अमरपाटन विधानसभा क्षेत्र है? क्या मऊ वंशीपुर में एवं ग्राम वंशीपुर में कुल 143 एकड़ शासकीय भूमि उपलब्ध है? क्या राज्य शासन ने एवं जिला प्रशासन ने मऊ वंशीपुर में शासकीय भूमि खसरा क्रमांक 222/2/1/1 रकवा 10.4 एकड़, खसरा क्रमांक 239 रकवा 9.21 एकड़, खसरा क्रमांक 242 में 3.45 एकड़, खसरा क्र. 248/2/3 में 42.50 एकड़, खसरा क्रमांक 249 में 3.72 एकड़, खसरा क्रमांक 250 में रकवा 34.96 एकड़ कुल 06 कितना क्षेत्रफल 105 एकड़ उपलब्ध है? (ख) क्या इसी तरह ग्राम वंशीपुर में शासकीय भूमि खसरा क्र. 642 रकवा 8.79 एकड़, खसरा क्र. 643/1 रकवा 18.43 एकड़, खसरा क्रमांक 651 रकवा 7.86 एकड़, खसरा क्रमांक 642 रकवा 2.06 एकड़ उपलब्ध है? दोनों ग्रामों में कुल मिलाकर 143 एकड़ शासकीय भूमि उपलब्ध है? (ग) प्रश्नकर्ता विधायक के द्वारा 18.10.2024 को लिखे पत्रों पर जिसका क्रमांक 304 है में सामान्य प्रशासन/राजस्व विभाग एवं मुख्यमंत्री कार्यालय ने किस पत्र/आदेश क्रमांकों एवं दिनांकों से कब-कब क्या कार्यवाही/पत्र/आदेश लिखे/जारी किये सभी की एक-एक प्रति दें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ, मैहर विधानसभा एवं अमरपाटन विधानसभा का भू-भाग लगभग बराबर है। तहसील मैहर के पटवारी हल्का वंशीपुर अंतर्गत ग्राम मऊ में आराजी नं. 222/2/1/1 रकवा 4.244 हे., आराजी नं. 239 रकवा 3.731 हे., आराजी नं. 242 रकवा 1.400 हे., आराजी नं. 248/2/3 रकवा 17.209 हे., आराजी नं. 249 रकवा 1.509 हे. एवं आराजी नं. 250 रकवा 14. 159 हे. कुल 6 किता कुल रकवा 42.252 हे. भूमि उपलब्ध है। (ख) जी हाँ। ग्राम वंशीपुर शासकीय भूमि आराजी नं. 642 रकवा 3.561 हे., आराजी नं. 643/1 रकवा 7.429 हे., आराजी नं. 651 रकवा 3.187 हे., आराजी क्रमांक 652 रकवा 0.836 हे. कुल 04 किता कुल रकवा 15.013 हे. भूमि उपलब्ध है। दोनों ग्रामों की कुल मिलाकर 57.265 हे. (लगभग 142 एकड़) शासकीय भूमि उपलब्ध है। (ग) ऐसा कोई पत्र राजस्व विभाग को प्राप्त नहीं हुआ है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
राजस्व प्रकरणों की जानकारी
[राजस्व]
110. ( क्र. 2727 ) श्री सुरेन्द्र पटवा : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भोजपुर विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत औबेदुल्लागंज, सुल्तानपुर, बाडी, तहसील में कितने राजस्व प्रकरण वर्तमान में लंबित है? (ख) प्रकरणों का निराकरण कब तक कर दिया जायेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) रायसेन जिले के अंतर्गत भोजपुर विधानसभा क्षेत्र के न्यायालयवार लंबित प्रकरण निम्नानुसार है:-
क्रं. |
तहसील |
लंबित प्रकरण |
1 |
औबेदुल्लागंज |
819 |
2 |
सुल्तानपुर |
115 |
3 |
बाड़ी |
149 |
योग |
1, 083 |
(ख) उत्तरांश ''क'' के लंबित प्रकरण का निराकरण, न्यायालयीन प्रक्रिया के अधीन किया जावेगा। समय-सीमा बताना संभव नहीं है।
चिकित्सा शिक्षा विभाग के कर्मचारियों की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
111. ( क्र. 2746 ) श्री देवेन्द्र पटेल [श्री बाला बच्चन] : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश राजपत्र (असाधारण) चिकित्सा शिक्षा विभाग दिनांक 26 जून 2023 के अनुसूची एक-स सेवा का वर्गीकरण, वेतनमान और पदों की संख्या (तृतीय श्रेणी) अनुसार अपस्ताल प्रबंधक, अस्पताल सहायक प्रबंधक, उप रजिस्ट्रार एवं बायोमेडिकल इंजीनियर को तृतीय श्रेणी का पद घोषित किया गया है? (ख) प्रदेश के विभिन्न चिकित्सा महाविद्यालयों में उक्त पदों पर पदस्थ कर्मचारियों को राजपत्रित अधिकारी के समान सुविधाएं क्यों दी जा रही है? इनका सर्विस रिकार्ड एवं सेवा संबंधी आदेश राजपत्रित शाखाओं से क्यों जारी किये जा रहे है? (ग) उपरोक्तानुसार पदस्थ कर्मचारियों को किन-किन तिथि से, किस-किस नियम के तहत, किन-किन अधिकारियों द्वारा, किन-किन को, पृथक चौबर, पृथक वाहन, शासकीय आवास आवंटन एवं आवास कटौत्रा, पृथक अधीनस्थ कर्मचारी, विभिन्न बैठकों में आमंत्रित सदस्य, वित्तीय पावर, इनको किये गए अग्रिम एवं अन्य भुगतान, तृतीय श्रेणी कर्मचारियों से इतर अधिकार इत्यादि की जानकारी महाविद्यालयवार, पदवार, पृथक-पृथक कर्मचारियों की पृथक-पृथक जानकारी देवें। (घ) क्या विभागीय प्रमुख सचिव आयुक्त महोदय इन तृतीय श्रेणी के कर्मचारियों को, अधिकारियों के जैसे अधिकार, सुविधाएँ, नियम विरुद्ध भुगतानों की पारदर्शी जाँच कराकर म.प्र. राजपत्र पालन सुनिश्चित कराएंगे? यदि नहीं, तो? विधिसम्मत कारण बतायें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। उक्त पदों की नियुक्ति चिकित्सा महाविद्यालय में गैर-शैक्षणिक पद पर राजपत्रित शाखा द्वारा की गई थी, इसलिये इनका सर्विस रिकार्ड एवं सेवा संबंधी आदेश राजपत्रित शाखा से जारी किये गये। (ग) चिकित्सा महाविद्यालय विदिशा, शिवपुरी, रीवा एवं ग्वालियर की महाविद्यालयवार, पदवार, कर्मचारियों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (घ) उत्तरांश (ख) एवं (ग) के परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्टार्स परियोजना में व्यय राशि की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
112. ( क्र. 2749 ) श्री बाला बच्चन : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के तारांकित प्रश्न क्रमांक 2528 दिनांक 10.07.2024 के प्रश्नांश (ख) उत्तर में राज्य शैक्षिक प्रंबधन एवं प्रशिक्षण संस्थान (सिमेट) एवं मध्यप्रदेश लघु उद्योग निगम को जो राशि प्रदाय की गई उसका व्यय जिन कार्यों में किया गया, इसकी जानकारी बिलों की छायाप्रति एवं TDS कटौत्रा सहित पृथक-पृथक उपरोक्त संदर्भित प्रश्न के प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में देवें। क्या कारण है कि केवल संस्थाओं के नाम देकर प्रश्नांश (ख) के उत्तर में व्यय की पूर्ण जानकारी नहीं दी गई? कारण स्पष्ट करें। ऐसा करने वाले संबंधित अधिकारियों के नाम, पदनाम बतावें कि विधानसभा प्रश्न में जानकारी छिपाने वाले ऐसे अधिकारियों पर विभाग कब तक कार्यवाही करेगा? (ख) प्रश्न दिनांक की स्थिति में स्टार्स परियोजना के बैंक खाते में कितनी राशि है? वर्ष 2022-23, 2023-24 एवं 2024-25 में प्राप्त आवंटन एवं उसके समक्ष वर्षवार व्यय की जानकारी देंवे। (ग) वर्ष 2024-25 में स्टार्स परियोजना में प्रश्न दिनांक तक व्यय राशि की जानकारी भुगतान प्राप्तकर्ता फर्म/व्यक्ति नाम, राशि भुगतान दिनांक एवं TDS कटोत्रा सहित देंवे। फर्म द्वारा प्रस्तुत बिलों की छायाप्रति भी देंवे। (घ) प्रश्नांश (क) अनुसार राशि के अनियमित व्यय एवं मनमाने आंवटन के उत्तरदायी अधिकारियों पर विभाग कब तक कार्यवाही करेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) स्टार्स परियोजना अंतर्गत राज्य शैक्षिक प्रबंधन एवं प्रशिक्षण संस्थान (सीमेट) को राशि रू. 21.00 करोड़ प्रधानाध्यापकों एवं जिला स्रोत समूह (डी.आर.जी.) के प्रशिक्षण हेतु राशि जारी की गयी थी। इसी प्रकार राशि रू. 6.00 करोड़ राष्ट्रीय स्तर की संस्थाओं में प्राचार्य एवं प्रधानाध्यापकों के प्रशिक्षण हेतु राशि जारी की गयी थी। सीमेट एक शासकीय संस्था है। अतः उन्हें प्रदाय की गयी राशि पर इस कार्यालय द्वारा कोई भी टी.डी.एस. कटौत्रा नहीं किया गया है। सीमेट द्वारा कराये गये प्रशिक्षण में किये गये व्यय एवं टी.डी.एस. की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''1'' अनुसार है। इसी प्रकार कार्यालय के रिनोवेशन हेतु लघु उद्योग निगम को निर्माण एजेन्सी तय करते हुए राशि रू. 24.00 लाख का भुगतान किया गया। लघु उद्योग निगम द्वारा कराये गये कार्यों के फर्म को किया गया भुगतान एवं टी.डी.एस. कटौत्रा की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''2'' अनुसार है। किसी भी अधिकारी द्वारा कोई जानकारी नहीं छिपायी गयी है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''3'' अनुसार। (ग) स्टार्स परियोजना अंतर्गत एस.एन.ए. खाता संधारित है जिसमें समस्त जिले के आईए खाते में व्यय सीमा प्रदाय की जाती है। भारत सरकार से स्वीकृत कार्ययोजना अनुसार सभी जिलों को निर्धारित व्यय सीमा अंतर्गत नियमानुसार व्यय सीमा जारी की जाती है, जिससे जिले स्वीकृत गतिविधियों में राशि नियमानुसार व्यय करते है। वर्ष 2024-25 में जिलों द्वारा व्यय एवं टी.डी.एस. कटौत्रा सहित जानकारी एकत्रित की जा रही है। राज्य कार्यालय द्वारा किये गये व्यय एवं टी.डी.एस. कटौत्रा की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''4'' अनुसार है। (घ) किसी भी राशि का कोई अनियमित व्यय एवं मनमाने ढंग से आवंटन नहीं किया गया अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
स्वास्थ्य व्यवस्था की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
113. ( क्र. 2756 ) श्री ओमकार सिंह मरकाम : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) उप स्वास्थ्य केन्द्र, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र एवं जिला चिकित्सालयों में मरीजों के इलाज हेतु क्या नियम है? (ख) प्रश्नांश (क) के नियमानुसार क्या डिण्डौरी जिला के सभी जगह नियमानुसार इलाज हो रहा है? अगर हाँ तो बतायें। (ग) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र करंनिया, बजाग, समनापुर, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र नारायनदीह, सरखवाडी, गोरखपुर बहापुर आदि में लोगों को सही इलाज क्यों नहीं मिल रहा है और अगर नहीं तो बतावें नियमानुसार इलाज क्यों नहीं हो रहा है? क्या कारण है? कब तक नियमानुसार सही इलाज होंगे?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) सामान्यत: उप स्वास्थ्य केन्द्र में गर्भवती महिलाओं की जांच, पंजीयन, टीकाकरण आदि का कार्य किया जाता है, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में प्राथमिक उपचार एवं प्राथमिक जांच के साथ ओ.पी.डी, आई.पी.डी का कार्य किया जाता है, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में उक्त कार्य के साथ-साथ 05 प्रकार की विशेषज्ञ सेवायें प्रदान की जाती है तथा जिला चिकित्सालय में उक्त उपचार के साथ-साथ द्वितीयक स्तर की स्वास्थ्य सेवायें तथा उच्च स्तर की जांचें प्रदान की जाती है। (ख) जी हाँ। डिण्डौरी जिले में 01 जिला चिकित्सालय, 01 सिविल अस्पताल, 06 सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, 26 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र तथा 189 उप स्वास्थ्य केन्द्र संचालित है। इन स्वास्थ्य संस्थाओं में उपलब्ध संसाधनों से नियमानुसार उपचार किया जा रहा है। (ग) उत्तरांश ''ख'' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नहरों का सुधार किया जाना
[जल संसाधन]
114. ( क्र. 2757 ) श्री ओमकार सिंह मरकाम : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि क्या डिण्डौरी जिला में बने बांध एवं एनीकट की पानी नहरों की खराब होने से किसानों की खेतों तक नहीं पहुंच रही है? अगर नहीं तो बतावें कि दनदना, रिकरीपिपरी बसनिया, बरगांव, देवलपुर दनाखी आदि जगह के कृषक क्यों आंदोलन कर रहे हैं? मेहदपानी विकासखण्ड में तो कृषकों में मतदान तक का बहिष्कार किया है और अगर हाँ तो नहरों की सुधार क्यों नहीं किया जा रहा है? नहरों की सुधार हेतु EE WRD ने कब-कब राशियों की मांग की? उन्हें राशि क्यों नहीं दी जा रही है?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी हाँ। डिण्डौरी जिले में निर्मित कुछ बांध एवं एनीकट में वर्षा के दौरान नहरों को हुई क्षति के कारण योजना के कमांड क्षेत्र अंतर्गत आने वाले आंशिक कृषकों के खेतो में पानी नहीं पहुंच पाना प्रतिवेदित है। दनदना जलाशय, रिकरीपिपरी (टिकरा जलाशय), बसनिया (भवरखंडी जलाशय) बरगांव जलाशय, देवलपुर जलाशय आदि जगह के कृषकों द्वारा आन्दोलन नहीं किया गया है किन्तु दनदना जलाशय के नहर सुधार हेतु आन्दोलन/विरोध प्रदर्शन किये जाने की सूचना दी गई, आन्दोलन के पूर्व ही दनदना जलाशय की नहर का साफ-सफाई कार्य पूर्ण कराया जाना प्रतिवेदित है। जी हाँ, मेहन्दवानी विकासखण्ड में कृषकों द्वारा मतदान से बहिष्कार करने की सूचना दी जाना प्रतिवेदित है। रबी सिंचाई के पूर्व नहरों की साफ-सफाई कराई गई। कार्यपालन यंत्री, जल संसाधन संभाग, डिण्डौरी को वित्तीय वर्ष 2024-25 में संस्थाओं के माध्यम से नहरों के सुधार कार्य हेतु कुल राशि रू 45.47 लाख का आवंटन दिया जाना प्रतिवेदित है। जिसके विरूद्ध दिनांक 10.03.2025 तक राशि रू 24.11 लाख व्यय किये जाना प्रतिवेदित हैं। विवरण संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। अतः शेष प्रश्न उपस्थित ही नहीं होता है।
जाति प्रमाण-पत्र की वैधता की जानकारी
[राजस्व]
115. ( क्र. 2772 ) डॉ. राजेन्द्र कुमार सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अपर तहसीलदार जिला ग्वालियर के कार्यालय से 06.08.1993 को मनोज पुत्र छोटेलाल जाति माझी, निवासी लश्कर तहसील ग्वालियर जिला ग्वालियर म.प्र. का माझी जनजाति का जाति प्रमाण-पत्र जारी हुआ था? एक प्रति उक्त प्रमाण-पत्र की उपलब्ध करायें। (ख) क्या प्रश्नांश (क) में वर्णित जाति प्रमाण-पत्र के लिये जो आवेदन एवं हलफनामे जमा किये गये थे, उनकी एक-एक प्रति उपलब्ध करायें। (ग) उक्त जाति प्रमाण-पत्र में मनोज केवल लिखा है जबकि उसका पूरा नाम मनोज कश्यप पिता का नाम केवल छोटेलाल लिखा है जबकि पिता का पूरा नाम छोटेलाल कश्यप है? कश्यप क्या ग्वालियर में अन्य पिछड़ा वर्ग में आते हैं या जनजाति मांझी में? (घ) क्या उक्त प्रमाण-पत्र जिसका उल्लेख (क) में हुआ फर्जी है या जारी हुआ है? जिला मजिस्ट्रेट/एस.डी.एम. की टीप उपलब्ध करायें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) तहसील ग्वालियर की वर्ष 89-90 से 92-93 की दायरा पंजी अनुसार मनोज पुत्र छोटेलाल निवासी लश्कर के नाम जाति प्रमाण-पत्र जारी किया जाना अंकित है। दायर पंजी की प्रति संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। प्रमाण-पत्र की द्वितीय प्रति उपलब्ध नहीं होने तथा दायरा पंजी में जाति दर्ज नहीं होने से यह कहना संभव नहीं है कि किस जाति का प्रमाण-पत्र जारी किया गया है। (ख) प्रश्नांश ''क'' में वर्णित जाति प्रमाण-पत्र के लिए तत्समय आवेदन एवं निर्धारित प्रारूप का प्रावधान नहीं होने से संबंधित अभिलेख संधारित नहीं किया जाता था। फलस्वरूप आवेदन एवं हलफनामे की प्रति उपलब्ध कराया जाना संभव नहीं है। (ग) अभिलेख उपलब्ध नहीं होने से जानकारी दी जाना संभव नहीं है। मध्यप्रदेश शासन द्वारा जारी ओ.बी.सी. जातियों की सूची में क्रमांक 12 पर ''कश्यप'' उपजाति का उल्लेख किया गया है। सूची संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) प्रश्नांश ''क'' के उत्तर के प्रकाश में दायरा पंजी अनुसार उक्त प्रमाण-पत्र जारी हुआ है। जाति प्रमाण-पत्र की जांच करने की अधिकारिता जिला मजिस्ट्रेट/एस.डी.एम. को नहीं होने से उक्त अधिकारियों की टीप उपलब्ध कराया जाना संभव नहीं है।
राजस्व एवं पुलिस अनुभागों को समान किया जाना
[राजस्व]
116. ( क्र. 2779 ) डॉ. अभिलाष पाण्डेय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्तमान में कई अनुभागों में एस.डी.एम. और एस.डी.ओ.पी./सी.एस.पी. के कार्य क्षेत्र अलग-अलग होने के कारण कानून व्यवस्था स्थापित करने में अनेक कठिनाइयां उत्पन्न हो रही है, इसके संबंध में सरकार का क्या दृष्टिकोण है? (ख) क्या विभाग द्वारा राज्य पुलिस सेवा और राज्य प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों के कार्य क्षेत्र को एक समान किए जाने पर विचार किया जाएगा, ताकि क्षेत्रीय स्तर पर प्रशासनिक और कानून व्यवस्था को मजबूती मिल सके? यदि हाँ, तो यह निर्णय कब तक लिया जाएगा? समय-सीमा बतावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) यह सही है कि कई अनुभागों में एस.डी.एम. और एस.डी.ओ.पी./सी.एस.पी. के कार्य क्षेत्र अलग–अलग होते हैं किन्तु कानून व्यवस्था स्थापित करने में सभी के द्वारा संयुक्त रूप से कार्य किया जाता है एवं कानून व्यवस्था स्थापित करने में कोई कठिनाई उत्पन्न नहीं हो रही है। (ख) राज्य शासन द्वारा इस संबंध में कोई प्रक्रिया विचाराधीन नहीं है। मध्यप्रदेश राज्य पुनर्गठन आयोग को प्रशासनिक इकाइयों के सीमाओं में आवश्यक परिवर्तन संबंधी सुझाव हेतु गठित किया गया है। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होता।
बंदोबस्त के समय दर्ज शासकीय भूमि की जानकारी
[राजस्व]
117. ( क्र. 2783 ) श्री पंकज उपाध्याय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश के गठन के बाद बंदोबस्त के समय ऐसी कोई शासकीय भूमि दर्ज थी जो कुछ वर्षों बाद वह खतौनी में निजी नाम पर दर्ज हो गई तथा विभाग के पास उस वर्ष के दस्तावेज या रिकार्ड उपलब्ध न हो तो ऐसी स्थिति में उस भूमि के विक्रय पर नामांतरण किया जाएगा या नहीं? जिलेवार प्रकरण बतायें। (ख) यदि कोई शासकीय भूमि को निजी नाम पर दर्ज करने के न्यायालयीन आदेश को अगले सक्षम न्यायालय में समय अवधि में चुनौती देने के क्या निर्देश हैं निर्देश की प्रति दें तथा उसका पालन अधिकारियों द्वारा न किया जा रहा हो तो उन पर क्या कार्रवाई होगी? (ग) ग्वालियर, इंदौर, चंबल, उज्जैन संभागों में ऐसे कितने प्रकरण हैं जिनमें सक्षम न्यायालय में चुनौती समय अवधि के बाद देकर शासन के विरुद्ध फैसले हुए एवं सुनवाई पर शासकीय अधिवक्ता अनुपस्थित रहे और एक तरफा शासन के विरुद्ध फैसला हुए। प्रकरणों की विस्तृत जानकारी खसरा, खतौनी, गांव सहित दें। (घ) ग्वालियर, इंदौर, चंबल तथा उज्जैन संभाग में ऐसे कितने प्रकरण हैं, जिनमें बंदोबस्त के समय निजी भूमि बाद में शासकीय दर्ज हो गई तथा उनके दस्तावेज/रिकॉर्ड शासन के पास नहीं है? ऐसे में क्या स्थिति होगी? ऐसी भूमियों के खसरा रकबा गांव इत्यादि समस्त जानकारी प्रदान करें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट–'अ' अनुसार। (ख) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट–'ब' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट–'स' अनुसार। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट–'द' अनुसार।
अनुदान प्राप्त विद्यालयों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
118. ( क्र. 2784 ) श्री पंकज उपाध्याय : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश में अनुदान प्राप्त विद्यालय खोले जाने की व्यवस्था कब की गई एवं अनुदान प्राप्त विद्यालय खोले जाने का उद्देश्य क्या था एवं उद्देश्य की प्राप्ति हेतु प्रदेश में कितने विद्यालय खोले गए एवं उन विद्यालय में नियुक्त शिक्षकों के वेतन भत्तों के लिए क्या प्रावधान किया गया था? (ख) विधानसभा क्षेत्र जौरा अंतर्गत कितने अनुदान प्राप्त विद्यालय हैं? उनमें से कितने विद्यालय पूर्णत: बंद है एवं कितने वर्तमान में संचालित हैं? जिन गांवों में अनुदान प्राप्त विद्यालय बंद है, वहां शिक्षा व्यवस्था के लिए शासन द्वारा क्या कार्यवाही की जा रही है? संपूर्ण जानकारी दस्तावेजों सहित उपलब्ध कराएं। (ग) प्रश्नांश (ख) से सम्बंधित विद्यालयों में कुल कितने शिक्षक पदस्थ है एवं विगत 5 वर्षों में कितने शिक्षक मृत्यु अथवा सेवानिवृत्त हो चुके हैं? (घ) अनुदान प्राप्त विद्यालयों में पदस्थ रहे अथवा वर्तमान में पदस्थ शिक्षकों का कितना भुगतान सरकार द्वारा किया जाना शेष है? (ङ) अनुदान प्राप्त शिक्षकों को सेवानिवृत्ति उपरांत ग्रेच्युटी एवं पेंशन का भुगतान किए जाने के संबंध में माननीय न्यायालय द्वारा भुगतान हेतु शासन को क्या निर्देश दिए गए हैं? शासन द्वारा अनुदान प्राप्त शिक्षकों के भुगतान हेतु क्या कार्यवाही की जा रही है? संपूर्ण जानकारी दस्तावेज सहित उपलब्ध कराएं।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) म.प्र. शासन शिक्षा विभाग के नियम दिनांक 27 जुलाई 1960 के अनुक्रम में अशासकीय विद्यालयों को मांग अनुसार अनुदान में प्रावधान किये गये हैं। अनुदान प्राप्त विद्यालय का उद्देश्य शिक्षा का विस्तार, प्रसार एवं सुधार करना था। इस उद्देश्य हेतु लगभग 1374 अशासकीय विद्यालयों को विभिन्न प्रयोजनों के लिये अनुदान प्रदान किया गया है। इन अशासकीय विद्यालयों में नियुक्त तथा अनुदान में मान्य शिक्षकों को वेतन संदाय अधिनियम 1978 के प्रावधानों के अंतर्गत संबंधित संस्था को अनुदान देने का प्रावधान है। (ख) विधानसभा क्षेत्र जौरा के विकासखंड जौरा पहाड़गढ़ एवं कैलारस में कुल 72 विद्यालय हैं जिसमें से 64 विद्यालय पूर्णतः बंद हैं एवं 8 विद्यालय वर्तमान में संचालित है। जिन गांवों में अनुदान प्राप्त विद्यालय बंद हैं, उन शालाओं में अध्ययनरत छात्र छात्राओं को निकटतम संचालित्त शासकीय प्राथमिक विद्यालयों में प्रवेश दिलाया जाकर उन्हें सुचारू रूप से नियमित शिक्षा प्रदान कराई जा रही है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-01 अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-02 अनुसार। (घ) अनुदान प्राप्त विद्यालयों में पदस्थ रहे एवं वर्तमान में पदस्थ शिक्षकों का भुगतान शेष नहीं है। (ड.) अनुदान प्राप्त शिक्षकों को सेवानिवृत्ति उपरांत ग्रेच्युटी का कोई प्रावधान नहीं है। इससे संबंधित प्रकरण वर्तमान में उच्च न्यायालय एवं उच्चतम न्यायालय में विचाराधीन है एवं पेंशन का भुगतान किये जाने के संबंध में कोई प्रावधान नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
वाहन पंजीयन कार्ड नहीं दिया जाना
[परिवहन]
119. ( क्र. 2787 ) डॉ. सतीश सिकरवार : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में वाहन क्रय करने एवं ड्राईविंग लायसेंस जारी करते समय परिवहन विभाग द्वारा शुल्क लिया जाकर कार्ड जारी करने का प्रावधान किस वर्ष से किया गया, आदेश की प्रति उपलब्ध कराई जावे। (ख) वर्तमान में प्रदेश के क्षेत्रीय परिवहन कार्यालयों द्वारा वाहन क्रय करने एवं ड्राईविंग लायसेंस आदि कार्ड जारी करने हेतु शुल्क लिया जा रहा है, किन्तु आवेदनकर्ताओं को कार्ड जारी क्यों नहीं किये जा रहे है? जानकारी दें। उक्त शुल्क से प्राप्त राशि में से कितनी राशि का भुगतान कम्पनी को किया जा रहा है? (ग) प्रश्नांश (ख) की अवधि में जारी किये गये विभिन्न कार्ड आवेदनकर्ताओं को कब तक उपलब्ध कराये जायेंगे। क्या कार्ड वितरण के समय आवेदनकर्ताओं से पुनः शुल्क लिया जायेगा? (घ) प्रश्नांश (ग) के संबंध में आवेदनकर्ताओं को कार्ड जारी करते समय पुनः शुल्क न लिये जाने के संबंध में क्या विभाग द्वारा आदेश जारी किये गये है, अगर नहीं तो आदेश कब तक जारी किये जायेंगे?
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय, भारत सरकार की अधिसूचना क्रमांक सा.क.नि. 400 (अ) दिनांक 31.05.2002 द्वारा ड्राईविंग लायसेंस एवं वाहन पंजीयन लेमीनेटेड कार्ड या स्मार्ट कार्ड में जारी करने हेतु शुल्क निर्धारित किया जाकर कार्ड जारी करने का प्रावधान वर्ष 2002 में किया गया है। अधिसूचना की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। (ख) मध्यप्रदेश शासन, परिवहन विभाग की अधिसूचना क्रमांक एफ-22-13-2018-आठ दिनांक 03.10.2024 द्वारा 01.10.2024 से ड्राईविंग लायसेंस एवं वाहन पंजीकरण प्रमाण पत्र सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम 2000 (2000 का 21) के उपबंधों के अधीन डिजिटल हस्ताक्षर या ई-हस्ताक्षर के माध्यम से जारी किये जा रहे हैं। अधिसूचना की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है। प्राप्त शुल्क में से किसी राशि का भुगतान कंपनी को नहीं किया जा रहा है। (ग) उत्तर प्रश्नांश (ख) के अनुसार है। कार्ड वितरण के समय आवेदनकर्ताओं से पुनः शुल्क लिये जाने के संबंध में शासन के कोई नियम नहीं हैं। (घ) कार्ड जारी करते समय आवेदनकर्ताओं से पुनः शुल्क लिये जाने के संबंध में शासन के कोई नियम नहीं हैं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं हैं।
कार्डियो थोरेसिक विभाग की स्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
120. ( क्र. 2789 ) डॉ. सतीश सिकरवार : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ग्वालियर-चंबल संभाग में करीबन 78 लाख की जनसंख्या वाले जिलों एवं उत्तर प्रदेश व राजस्थान के समीपवर्ती संभाग के गरीब मरीजों को दिल का ऑपरेशन कराने हेतु 'कार्डियो थोरेसिक' विभाग खोले जाने हेतु मुख्यमंत्री महोदय को केन्द्रीय संचार मंत्री/वर्तमान व पूर्व मंत्रियों/लोकसभा व राज्यसभा सदस्यों एवं विधायकों द्वारा बार-बार अनुरोध किया जा रहा है? (ख) कार्डियोलॉजी विभाग के अंतर्गत कार्डियो थोरेसिक विभाग खोले जाने की आवश्यकता को देखते हुये डीन मेडिकल कॉलेज ग्वालियर द्वारा भी विभिन्न पदों एवं उपकरणों हेतु पत्र क्रमांक 1415 दिनांक 03.10.2024 प्रेषित किया गया है। इस संबंध में प्रस्ताव संचालनालय स्तर पर काफी समय से विचाराधीन है? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के संबंध में कार्डियो थोरेसिक विभाग खोले जाने की मांग जनमानस की आवश्यकता को देखते हुये जनप्रतिनिधियों एवं मेडिकल कॉलेज के मुखिया द्वारा भी जनहित में की जा रही है। (घ) प्रश्नांश (ग) के संबंध में जनहित की उपयोगिता को देखते हुये विभाग द्वारा कब तक निर्णय लिया जाकर जयारोग्य चिकित्सालय समूह अस्पताल में कार्डियो थोरेसिक विभाग की स्थापना की जावेगी? समय-सीमा बताएं।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) से (ग) जी हाँ। (घ) विभाग में आवश्यकता के साथ-साथ वित्तीय संसाधनों की उपलब्धता के आधार पर चिकित्सा महाविद्यालय में नवीन विभाग खोले जाने का निर्णय लिया जाता है। अत: समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
मच्छरदानियों का वितरण
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
121. ( क्र. 2791 ) श्री मोहन सिंह राठौर : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में मलेरिया इत्यादि रोगों से बचाव के लिए मच्छरदानियों का क्रय किया गया था? यदि हाँ तो किस नियम एवं निर्देषों के तहत? क्रय की गई मच्छरदानियों का प्रदाय जिला स्तर पर किस आधार पर किया गया? जिलावार प्रदाय मच्छरदानियों की जानकारी दें। (ख) ग्वालियर जिले के लिए कितनी मच्छरदानियां उपलब्ध कराई गई? क्या इनका क्रय प्रदेश स्तर से किया गया या जिला स्तर से किया गया था एवं किस नियम के तहत? क्रय प्रक्रिया की जानकारी दें। (ग) क्या वितरित मच्छरदानियों में वितरण में अनियमितता हुई है? क्या भितरवार विधानसभा क्षेत्र के नगर परिषद् आंतरी के वार्ड क्रमांक 15 में 4510 मच्छरदानियां वितरित की गई है जबकि हितग्राहियों की संख्या काफी कम है? भितरवार विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत किन-किन हितग्राहियों को मच्छरदानी वितरित की गई है? नगर परिषद् के वार्डवार एवं ग्राम पंचायतवार जानकारी दें। (घ) क्या भितरवार विधानसभा क्षेत्र के नगर परिषदों के वार्डों एवं ग्राम पंचायतों में भी इसी प्रकार का अनियमित वितरण किया गया है? यदि हाँ तो क्या पूरे प्रकरण की जांच कराई जायेगी? यदि हाँ तो कब तक?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। भारत सरकार द्वारा वर्ष 2023-24 में राष्ट्रीय वेक्टर जनित रोग नियंत्रण केंद्र अंतर्गत एल.एल.आई.एन. (मच्छरदानियों) का क्रय किया गया तथा मध्यप्रदेश को कुल 94, 68, 400 नग एल.एल.आई.एन. (मच्छरदानियों) निःशुल्क प्रदान की गई। भारत सरकार द्वारा प्रदेश के 10 जिलों को कंसाईनी निर्मित कर मच्छरदानियों की प्रदायगी की गई। प्रदेश द्वारा उन 10 कंसाईनी जिलों से विकासखण्ड स्तर तक मच्छरदानियों का परिवहन किया गया तथा जिलों द्वारा विकासखण्ड स्तर से उपस्वास्थ्य केंद्र/वितरण केंद्र तक परिवहन किया गया। जिलावार प्रदायित मच्छरदानियों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) ग्वालियर जिले के लिए 314400 मच्छरदानियां उपलब्ध कराई गई। जी नहीं, उत्तरांश ''क'' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं। मच्छरदानी वितरण में अनियमितता की कोई शिकायत विभाग को प्राप्त नहीं हुई है। जी नहीं। भितरवार विधानसभा क्षेत्र में हितग्राहियों को मच्छरदानी वितरण की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। (घ) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
चिकित्सा अधिकारी के विरूद्ध शिकायतें
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
122. ( क्र. 2793 ) श्री मोहन सिंह राठौर : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विकासखण्ड चिकित्सा अधिकारी बरई, जिला ग्वालियर के पद पर कौन अधिकारी पदस्थ है? क्या विकासखण्ड चिकित्सा अधिकारी बरई, जिला ग्वालियर के विरूद्ध गंभीर अनियमितताओं की शिकायत प्रदेश स्तर, जिला स्तर, पर प्राप्त हुई है? यदि हाँ तो क्या-क्या? शिकायती पत्रों की प्रति उपलब्ध करायें। (ख) क्या विकासखण्ड चिकित्सा अधिकारी बरई के विरूद्ध प्राप्त शिकायतों की जांच की गई है? यदि हाँ तो क्या शिकायतों की जाँच रिपोर्ट जिला स्तर से आयुक्त, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग को प्रेषित की गई है? यदि हाँ तो जाँच रिपोर्ट की प्रति उपलब्ध करायें। (ग) क्या विकासखण्ड चिकित्सा अधिकारी बरई को अन्यत्र पदस्थ करने हेतु जनप्रतिनिधियों के माध्यम से माननीय विभागीय मंत्री जी/शासन को प्रस्ताव प्राप्त हुए है? यदि हाँ तो अभी तक अन्यत्र पदस्थ क्यों नहीं किया गया? कब तक अन्यत्र पदस्थ कर दिया जायेगा? समय-सीमा बताएं। (घ) प्रश्नांश ''ख'' में उल्लेखित जाँच रिपोर्ट में विभाग द्वारा अभी तक कोई कार्यवाही क्यों नहीं की गई? विभाग कब तक कार्यवाही करेगा? यदि हाँ तो समय-सीमा बताएं। यदि नहीं, तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) डॉ. सुनील पाराशर, चिकित्सा अधिकारी प्रभारी खण्ड चिकित्सा अधिकारी के पद पर पदस्थ हैं। जी हाँ। जिला स्तर एवं प्रदेश स्तर पर प्राप्त शिकायती पत्र की प्रति संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) जी हाँ, जिला स्तर पर जाँच समिति गठित कर जाँच कराई गई। जी हाँ, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जिला ग्वालियर से दिनांक 10.03.2025 को प्राप्त जाँच रिपोर्ट प्रति संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ग) जी हाँ। जाँच प्रतिवेदन के आधार पर प्रकरण पर विभागीय कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उपरोक्त उत्तरांश 'ग' के परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नवीन भवन की स्वीकृति
[स्कूल शिक्षा]
123. ( क्र. 2796 ) श्री प्रदीप अग्रवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दतिया जिले के विधानसभा क्षेत्र सेवड़ा में कुल कितने हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल हैं? स्कूलों की नामवार/ग्रामवार सूची उपलब्ध कराई जावे। (ख) उक्त स्कूलों में कौन-कौन से स्कूलों के भवन बने हुए हैं और कौन-कौन से के भवन नहीं बने हैं, पूर्व से स्वीकृत उचियां एवं भडौल स्कूल भवन का निर्माण कब कराया जाएगा? सूची सहित संपूर्ण जानकारी दी जावे। (ग) क्या मंगरौल, दिगुवां, देभई, टेढ़ा, पडरी, मेवली, परसोंदा वामन, रूहेरा, परसोंदा गुर्जर, कन्या उच्चतर माध्यमिक विद्यालय सेवड़ा, नीमडांढा, जुझारपुर, महोनाजाट एवं उचाढ अपग्रेड किए गए हैं जो भवन विहीन है बच्चों के अध्ययन हेतु यहां जगह का अत्यंत अभाव है जिससे अध्ययन व अध्यापन में समस्या आ रही है, यदि हाँ, तो यहाँ भवन स्वीकृत किया जाए, यदि नहीं, तो इन स्कूलों की टीम बनाकर सघन जांच कराई जावे। (घ) क्या उक्त भवन विहीन विद्यालयों में छात्र-छात्राओं के उज्जवल भविष्य को देखते हुए नवीन भवन स्वीकृत करेंगे यदि हाँ, तो कब तक स्वीकृति प्रदान की जाएगी, जानकारी उपलब्ध कराई जावे।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) शासकीय हाई स्कूल एवं हायर सेकेन्डरी भवन क्रमशः माध्यमिक एवं हाई स्कूल के उन्नयन से अस्तित्व में आते है, अतः उन्नत हुए माध्यमिक शाला एवं हाई स्कूल के भवन ही क्रमशः हाई स्कूल और हायर सेकेन्डरी भवन है। अतः शेषाश उद्भूत नहीं होता है। (ग) जी हाँ। जानकारी उत्तरांश 'ख' अनुसार है। विद्यार्थी नामांकन के अनुसार अतिरिक्त आवश्यकता होने पर अधोसंरचना का सुदृढ़ीकरण किया जाता है जो बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। अतः शेषांश उद्भूत नहीं होता। (घ) जानकारी उत्तरांश 'ग' अनुसार है। अतः समय-सीमा बताया जाना सभव नहीं है। शेषांश उद्भूत नहीं होता।
नहरों पर पक्की सड़कों का निर्माण
[जल संसाधन]
124. ( क्र. 2798 ) श्री प्रदीप अग्रवाल : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दतिया जिले में दिनांक 1/4/2023 से प्रश्न दिनांक तक राजघाट दतिया विभाग से कितनी राशि का आवंटन प्राप्त हुआ, इसमें से कितनी-कितनी राशि कहां-कहां खर्च की गई, विकासखंडवार/नहरवार/कार्य के नाम सहित जानकारी दी जावे। (ख) क्या उक्त राशि का सही एवं जनहित की दृष्टि से उपयोग नहीं हुआ है नहरों पर बनी सड़कों का मरमतीकरण अथवा निर्माण नहीं कराया गया है यदि नहीं, तो विभाग द्वारा कराए गए कार्यों की एक टीम गठित कर जांच कराई जावे। (ग) सेवड़ा विधानसभा क्षेत्र के अधिकांश ग्रामों का नहर मार्ग से संपर्क है यदि इन नहर मार्गों पर पक्की सड़क बना दी जाए तो जनहित के साथ-साथ मुख्य मार्गों का लोड कम होगा, समय की बचत होगी एवं दुर्घटनाओं में कमी आएगी। (घ) क्या विभाग विधानसभा क्षेत्र सेवड़ा के नहर मार्गों के निर्माण हेतु आदेश प्रसारित करेगा यदि हाँ, तो कब तक स्वीकृति प्रदान की जाएगी? जानकारी उपलब्ध कराई जावे।
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) दतिया जिले में संलग्न परिशिष्ट अनुसार स्वीकृत कार्यों के विरूद्ध जनहित की दृष्टि से कार्य कराया जाना प्रतिवेदित है। जिसमें नहरों की सड़क का मरम्मत कार्य सम्मिलित नहीं होना प्रतिवेदित है। अतः शेष प्रश्नांश का प्रश्न नहीं। (ग) एवं (घ) विभाग द्वारा निर्मित नहरों पर सर्विस रोड मुख्य रूप से नहरों के रखरखाव को दृष्टिगत रख कर निर्मित की जाती है, जो आम जनता के परिवहन हेतु रूपांकित नहीं है। अतः शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पन्ना जिले में मेडिकल कॉलेज प्रारंभ किया जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
125. ( क्र. 2799 ) श्री ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या यह सही है कि विधानसभा सत्र जुलाई 2024 के तारांकित प्रश्न क्रमांक 680 में प्रश्नकर्ता द्वारा पन्ना जिले में मेडिकल कॉलेज प्रारंभ किये जाने के संबंध में प्रश्न पूछा था जिसके उत्तर में माननीय मंत्री जी द्वारा पी.पी.पी. मोड पर मेडिकल कॉलेज खोले जाने के संबंध में निविदा की कार्यवाही प्रचलन में है से अवगत कराया गया था? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या निविदा की कार्यवाही पूर्ण कर ली गई है? यदि नहीं, तो क्यों? कारण बतावें। कब तक कार्यवाही पूर्ण कर पन्ना जिले में मेडिकल कॉलेज प्रारंभ किया जावेगा?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। पन्ना जिले हेतु किसी भी निविदाकार द्वारा निविदा में भाग नहीं लिया गया है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
मजरे-टोलों को राजस्व ग्राम बनाया जाना
[राजस्व]
126. ( क्र. 2800 ) श्री ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पन्ना विधानसभा में ऐसे कितने मजरे-टोले हैं जिन्हें 2019 से 2024 के मध्य राजस्व ग्राम बनाया जाना प्रस्तावित किया गया है? उन पर राजस्व ग्राम बनाने का प्रस्ताव आयुक्त भू-अभिलेख को कब प्रेषित किया गया था? प्रस्ताव भेजने से अब तक कितना समय हो चुका है? क्या इनके निर्माण की कोई समय-सीमा निर्धारित है? (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित ग्रामों को राजस्व ग्राम बनाये जाने हेतु क्या-क्या कार्यवाही किस स्तर पर लंबित है? लगभग 03 वर्ष से अधिक समय होने पर भी कार्य पूर्ण न होने के लिये कौन दोषी है? दोषियों के विरूद्ध क्या कार्यवाही की जावेगी? कब तक प्रक्रिया पूर्ण कर ली जावेगी? जानकारी दें। (ग) पन्ना विधानसभा अन्तर्गत प्राकृतिक आपदा से प्रभावित कितने व्यक्तियों के प्रकरण भुगतान हेतु लंबित है? नामवार जानकारी देवें। भुगतान न होने का क्या कारण है? कब तक भुगतान की कार्यवाही पूर्ण की जावेगी? (घ) विधानसभा सत्र दिसम्बर 2024 के अतारांकित प्रश्न क्रमांक 925 दिनांक 18.12.2024 में प्रश्नकर्ता द्वारा धरमपुर में नवीन तहसील खोले जाने के संबंध में प्रश्न पूछा गया था जिसके उत्तर में माननीय मंत्री जी द्वारा जी हाँ कार्यवाही प्रक्रियाधीन है से अवगत कराया गया था। क्या उक्त कार्यवाही पूर्ण कर ली गई है? यदि नहीं तो कार्यवाही किस स्तर पर लंबित है? कब तक कार्यवाही पूर्ण कर धरमपुर में नवीन तहसील खोली जावेगी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) पन्ना विधानसभा अंतर्गत वर्ष 2019 से 2024 के मध्य 09 मूल राजस्व ग्रामों से कुल 17 मजरा टोलों को नवीन राजस्व ग्राम बनाये जाने हेतु प्रस्तावित किया गया है। उक्त ग्रामों का प्रस्ताव आयुक्त भू-अभिलेख मध्यप्रदेश ग्वालियर को कार्यालय अधीक्षक भू-अभिलेख के पत्र क्रमांक 2452/म.टो./भू-अभि./2021 पन्ना दिनांक 08.10.2021 को प्रेषित किया गया था। उक्त ग्रामों की अधिसूचना क्रमांक 1237-भू-सर्वेक्षण-2021 ग्वालियर दिनांक 26 नवम्बर 2021 का मध्यप्रदेश राजपत्र में प्रकाशन 03 दिसम्बर 2021 में किया गया है। प्रस्ताव भेजने से अब तक लगभग 03 वर्ष हो चुके है। उक्त ग्रामों के अभिलेख निर्माण का कार्य जिला स्तर पर ही प्रक्रियाधीन है। कार्यालय आयुक्त भू-अभिलेख द्वारा समय-सीमा में शीघ्र कार्य पूर्ण करने के निर्देश जिले को दिए गये हैं। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित ग्रामों को राजस्व ग्राम बनाये जाने हेतु राजस्व ग्राम के नक्शा विभाजन उपरान्त नक्शे पर तरमीम एवं रीनंबरिंग सूची तैयार करने का कार्य तहसीलदार एवं सहायक सर्वेक्षण अधिकारियों के द्वारा कराया जा रहा है। उक्त कार्य जिला/तहसील स्तर पर लंबित है। तरमीम कार्य में विवादित आराजियों में सभी पक्षकारों की सुनवाई कर निराकारण किया जा रहा है। संबंधित तहसीलदार एवं सहायक सर्वेक्षण अधिकारियों को विवादित तरमीम प्रकरणों का शीघ्र निराकरण कर तरमीम एवं रिनंबरिंग सूची तैयार करने की कार्यवाही पूर्ण करने के निर्देश दिये गये है। उक्त कार्य शीघ्र पूर्ण करा लिया जायेगा। नक्शा तरमीम का कार्य सभी पक्षकारों की सहमति के उपरान्त ही संभव है। अतः उक्त कार्य में विलम्ब के लिये कोई अधिकारी/कर्मचारी दोषी नहीं है। (ग) पन्ना विधानसभा अंतर्गत प्राकृतिक आपदा से प्रभावित 19 व्यक्तियों के प्रकरणों का भुगतान लंबित है। भुगतान लंबित होने के कारण सहित नामवार सूची संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) मध्यप्रदेश शासन राजस्व विभाग मंत्रालय भोपाल के पत्र क्रमांक 694/2021/सात-7 भोपाल दिनांक 02.03.2022 के पालन में अनुविभागीय अधिकारी रा. अजयगढ़ जिला पन्ना को कार्यालयीन पत्र क्रमांक 638 पन्ना दिनांक 07.04.2022 एवं पत्र क्रमांक 437/184/2022/सात/शा-7 भोपाल दिनांक 20.09.2022 के पालन में अनुविभागीय अधिकारी रा. अजयगढ़ जिला पन्ना को कार्यालयीन स्मरण पत्र क्रमांक 1937 पन्ना दिनांक 07.10.2022 जारी किया जाकर धरमपुर को नवीन तहसील बनाये जाने के संबंध में विधिवत प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिये गये। तत्पश्चात अनुविभागीय अधिकारी रा. अजयगढ़ जिला पन्ना से पत्र क्रमांक 1057 अजयगढ़, दिनांक 03.12.2024 द्वारा धरमपुर को नवीन तहसील बनाये जाने हेतु अपूर्ण प्रस्ताव प्राप्त हुआ है। जिसके कारण पुनः कार्यालयीन क्रमांक 2498 पन्ना दिनांक 07.01.2025 द्वारा अनुविभागीय अधिकारी रा. अजयगढ़ जिला पन्ना को नियमों के परिप्रेक्ष्य में भली भांति परीक्षण कर नियम 2018 में प्रारूप-दो में सम्पूर्ण प्रस्ताव भेजने के निर्देश दिये गये हैं, प्रस्ताव प्राप्त होते ही प्रकरण में अग्रिम कार्यवाही की जावेगी।
औषधियों की गुणवत्ता एवं परीक्षण की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
127. ( क्र. 2803 ) श्री विवेक विक्की पटेल : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश पब्लिक कॉर्पोरेशन हेल्थ लिमिटेड (MPPHSCL) भोपाल से दिनांक 20/02/2024 को पत्र क्रमांक 1401/एफ:473/2022 एवं 1406/एफ:482/22 जारी कर दो अलग-अलग औषधियों के गुणवत्ता हेतु शासकीय विश्लेषक, औषधि परीक्षण प्रयोगशाला खाद्य औषधि प्रशासन भोपाल द्वारा गुणवता परीक्षण रिपोर्ट क्र. क्रमश: 50N दिनांक 01 दिसम्बर 2022 एवं 38N दिनांक 31 अक्टूबर 2022 को अमानक घोषित करने उपरांत सम्बंधित प्रदायकर्ता/कम्पनी को ब्लैक लिस्ट किया गया है? यदि हाँ, तो क्या कार्यवाही गयी? (ख) उपरोक्तानुसार दोनों अमानक औषधियों के उपयोग पर MPPHSCL द्वारा तत्काल रोक क्यों नहीं लगाईं गयी? किन-किन जिलो में उक्त अमानक औषधियों का वितरण किया गया? शासकीय लैब से रिपोर्ट आने की तिथि से प्रदायकर्ता/कम्पनी को ब्लेक लिस्ट करने तक की कार्यवाही में 400 से अधिक दिवसों का समय क्यों लगाया गया? विभागीय स्तर क्या स्पष्टीकरण प्राप्त किये गए? (ग) उक्त सम्बन्ध में एवं MPPHSCL में व्याप्त अनियमितताओं एवं अन्य गड़बड़ियों को लेकर सम्बंधितों पर उचित कार्यवाही हेतु कार्पोरेशन मैनेजिंग डारेक्टर को स्पीड पोस्ट क्र. EI876817961IN, EI872985712N, EI872985669IN EI876817913IN, EI876820501IN, EI876820458IN, के माध्यम से प्रेषित प्रत्येक सूचना पत्र पर क्या-क्या कार्यवाही की गयी, संबंधितों से क्या कथन/स्पष्टीकरण लिए गए एवं क्या दोषियों पर निलंबन/बर्खास्तगी की कार्यवाही की गयी? यदि नहीं, तो युक्तियुक्त कारण बतावें l
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ, शासकीय विश्लेषक, औषधि परीक्षण प्रयोगशाला खाद्य औषधि प्रशासन भोपाल द्वारा गुणवत्ता परीक्षण रिपोर्ट क्रमांक क्रमश: 50N दिनांक 01 दिसम्बर, 2022 एवं 38N दिनांक 31 अक्टूबर, 2022 में उल्लेखित फर्मों की औषधियों को निविदा शर्तानुसार कार्यवाही करते हुए ब्लेक-लिस्ट/डीबार एवं बैच वैल्यु रिकवरी संबंधी कार्यवाही की गई है। (ख) जी नहीं, रिपोर्ट क्रमांक 50N दिनांक 01 दिसम्बर, 2022 एवं 38N दिनांक 31 अक्टूबर, 2022 प्राप्ति से पूर्व ही औषधियों के बैचों की शिकायत/अनुबंधित एन.ए.बी.एल. प्रयोगशाला द्वारा प्रेषित अमानक रिपोर्ट के आधार पर मध्यप्रदेश पब्लिक हेल्थ सर्विसेस कार्पोरेशन लिमिटेड द्वारा पत्र क्रमांक 6931 दिनांक 12 सितम्बर, 2022 एवं 7533 दिनांक 23 सितम्बर, 2022 के माध्यम से रोक लगा दी गई थी। उक्त औषधि के बैच की फर्म द्वारा प्रदायित Third Party NABL Test Reportके मानक गुणवत्ता परीक्षण रिपार्ट के आधार पर ही दवा प्रविष्ट कर वितरण किया गया है। औषधि के बैच को शासकीय प्रयोगशाला द्वारा रिपोर्ट क्रमांक 50N दिनांक 01 दिसम्बर, 2022 एवं 38N दिनांक 31 अक्टूबर, 2022 के माध्यम से अमानक पाये जाने पर तत्काल प्रभाव से रोका गया है जिससे प्रदेश की स्वास्थ्य संस्थाओं में अमानक दवाओं के वितरण का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। मध्यप्रदेश पब्लिक हेल्थ सर्विसेस कार्पोरेशन लिमिटेड द्वारा निविदा शर्तानुसार शासकीय प्रयोगशाला से प्राप्त औषधियों की गुणवत्ता जांच रिपोर्ट को अंतिम एवं निर्णायक मानते हुए ही कार्यवाही की जाती है। शासकीय प्रयोगशाला द्वारा जारी रिपोर्ट क्रमांक क्रमश: 50N दिनांक 01/12/22 एवं 38N दिनांक 31/10/2022 के अंतर्गत औषधियों की गुणवत्ता परीक्षण अमानक रिपोर्ट में उल्लेखित "Reason:- The sample fail to comply in respect of label requirement" में स्पष्टता न होने के कारण शासकीय प्रयोगशाला, नियंत्रक खाद्य एवं औषधि प्रशासन, मध्यप्रदेश से स्पष्ट अभिमत प्राप्त किए जाने हेतु कार्पोरेशन कार्यालय द्वारा विभिन्न क्रमश: पत्र क्रमांक (1) 9069 दिनांक 23 नवम्बर, 2022 (2) 635 दिनांक 11 जनवरी, 2023 (3) 1147 दिनांक 25 जनवरी, 2023 (4) 1587 दिनांक 10 फरवरी, 2023 (5) 3691 दिनांक 04 मई, 2023 एवं (6) 6815 दिनांक 24 अगस्त, 2023 प्रेषित किए गये। उक्त के परिप्रेक्ष्य में नियंत्रक खाद्य एवं औषधि प्रशासन, मध्यप्रदेश द्वारा प्रेषित पत्र क्रमांक:V/Misc/February-18/2023/744 भोपाल, दिनांक 02 फरवरी, 2024 के माध्यम से जानकारी उपलब्ध कराते हुए औषधियों के संबंध में निर्णायक अभिमत प्रेषित किया गया। तदोपरांत नियंत्रक खाद्य एवं औषधि प्रशासन, मध्यप्रदेश द्वारा प्रेषित रिपोर्ट/स्पष्ट अभिमत के आधार पर निविदा शर्तानुसार कार्यवाही करते हुए दिनांक 20 फरवरी, 2024 को उक्त दोनों रिपोर्टस में उल्लेखित प्रदायकर्ता फर्मों की औषधियों को ब्लैक-लिस्ट/डीबार किया गया है, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। जिसमें कार्यालय मध्यप्रदेश पब्लिक हेल्थ सर्विसेस कार्पोरेशन लिमिटेड द्वारा किसी भी प्रकार का कोई विलंब नहीं किया गया है, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के संबंध में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता एवं मध्यप्रदेश पब्लिक हेल्थ सर्विसेस कार्पोशन लिमिटेड, भोपाल को प्राप्त विभिन्न पत्रों के संबंध में कार्यालय द्वारा जारी आदेश क्रमांक 812, भोपाल, दिनांक 25 फरवरी, 2025 के माध्यम से कमेटी गठित की गई है। गठित कमेटी की रिपोर्ट प्राप्ति उपरांत आवश्यक कार्यवाही की जावेगी, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है।
जिला अस्पताल में औषधि खरीदी में अनियमितता
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
128. ( क्र. 2804 ) श्री विवेक विक्की पटेल : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सिविल सर्जन जिला अस्पताल भोपाल द्वारा अपने पत्र क्र 8041 दिनांक 17/05/2024 द्वारा स्वास्थ्य आयुक्त को चिकित्सालय में एक्सपायरी दवाओं के सम्बन्ध में छः बिन्दुओं में अपना स्पष्टीकरण/वस्तुस्थिति की जानकारी दी गयी है? यदि हाँ, तो भंडार शाखा में लाखो रुपये की मिली एक्सपायर दवायें, पत्र के बिंदु क्र 03 में इंजेक्शन नहीं खरीदने एवं बिंदु क्र 04 में GEM से लाखो की खरीदी के विरोधाभासी बयान एवं उक्त स्पष्टीकरण में एक्सपायर दवाओं का नियम विरुद्ध विनिष्टीकरण एवं आम नागरिको को स्टोर में बंदी बनाने इत्यादि का उल्लेख नहीं करने पर भी क्या स्वास्थ्य आयुक्त उपरोक्त स्पष्टीकरण/वस्तुस्थिति से संतुष्ट है यदि नहीं, तो क्या कार्यवाही हुई? (ख) क्या सिविल सर्जन द्वारा कार्पोरेशन से GEM पोर्टल से खरीदी हेतु कितने वायल की NOC ली गयी? क्या छः माह के लिए केवल 65 वायल की ही मांग थी? फिर GEM से 400 वायल की खरीदी क्यों की गई? स्टेट NRCP नोडल अधिकारी की जानकारी के बिना और बिना कलेक्टर अनुमोदन के लगभग 20 लाख की रेबीज वेक्सिन क्यों खरीदी गयी? (ग) क्या स्वास्थ्य आयुक्त, सिविल सर्जन के उपरोक्त भ्रामक एवं तथ्यहीन स्पष्टीकरण को देखते हुए सम्बंधित स्टोर कीपर द्वारा की जा रही अनियमितताओं और लापरवाही को पर्याप्त कारण मानते हुए तत्काल निलंबन/बर्खास्तगी की कार्यवाही करेंगे? यदि नहीं, तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। प्राप्त वस्तुस्थिति परीक्षणाधीन है। (ख) जी नहीं। जी हाँ। जी नहीं, डॉग बाईट के प्रकरणों में आकस्मिक वृद्धि के दृष्टिगत कार्यालय सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक जिला भोपाल द्वारा कुल राशि रू. 4, 62, 054/- मूल्य के एंटी रेबीज इम्यूनोग्लोब्यूलिन इंजेक्शन के कुल 115 वायल का उपार्जन किया गया। एंटी रेबीज इम्यूनोग्लोब्यूलिन इंजेक्शन के क्रय हेतु स्टेट NRCP नोडल अधिकारी से अनुमति लिये जाने का प्रावधान/नियम नहीं है। सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक जिला भोपाल द्वारा इंजेक्शन का क्रय किया गया, जो सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक को प्रदान की गई वित्तीय शक्ति के अनुसार है। (ग) उत्तरांश "क" के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
तहसीलदार के विरूद्ध शिकायतों पर कार्यवाही
[राजस्व]
129. ( क्र. 2807 ) श्री दिनेश राय मुनमुन : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी जिले में तहसीलदार मीना दशरिया की पदस्थी उपरांत इनके द्वारा विधि विरूद्ध तरीके से कार्य करने एवं रंजिशन कार्य करने के खिलाफ शासन एवं संचालनालय में विभिन्न शिकायतें प्राप्त हुई हैं, इन सभी शिकायतों की प्रतियां देवें। इन शिकायतों पर शासन व संचालनालय स्तर से प्रत्येक शिकायत पर जाँच किये जाने बाबत् आदेश/निर्देश पत्रों की प्रति देवें। (ख) प्रश्नांश (क) उल्लेखित अधिकारी के विरूद्ध प्रचलित सभी आरोपो की जांच पूर्ण नहीं करने एवं कार्यवाही नहीं किये जाने का कारण बताएं। उक्त प्रत्येक शिकायत की जांच व कार्यवाही पूर्ण कब तक की जावेगी? निश्चित समय-सीमा बतायें। इस अधिकारी के सिवनी जिले से अन्यंत्र स्थानांतरण किये जाने के आदेश की प्रति देवें। (ग) क्या उक्त स्थानांतरण आदेश पर हाईकोर्ट से एक पक्षीय स्थगन प्राप्त हुआ है? यदि नहीं, तो जबरन सिवनी में पदस्थ रहने के पीछे क्या कारण है? यदि हाँ, तो क्या हाईकोर्ट में प्रस्तुत याचिका में प्राप्त एकपक्षीय स्थागन को समाप्त किये जाने बाबत् शासन कोई कार्यवाही कर रहा है? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) श्रीमती मीना दशरिया, तहसीलदार सिवनी की मान. विधायक श्री दिनेश राय मुनमुन की एक शिकायत के आधार पर माननीय मुख्यमंत्री कार्यालय से ए+ में सिवनी जिले से अन्यत्र स्थानांतरण का प्रस्ताव प्राप्त हुआ। विभागीय आदेश दिनांक 23/10/2024 के द्वारा श्रीमती दशरिया के स्थानांतरण जिला सिवनी से जिला छिंदवाड़ा किया गया शिकायत की प्रति संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जानकारी उत्तरांश ''क'' अनुसार। (ग) श्रीमती मीना दशरिया द्वारा स्थानांतरण आदेश दिनांक 23.10.2024 के विरूद्ध माननीय उच्च न्यायालय जबलपुर में डब्ल्यू.पी. क्र. 33994/2024 प्रस्तुत की जिसमें पारित आदेश दिनांक 12/11/2024 के अनुसार श्रीमती दशरिया के अभ्यावेदन पर निर्णय किये जाने तक सिवनी जिले में कार्य करने हेतु आदेश प्रदाय किये गये। श्रीमती दशरिया के संबंध में निर्णय की प्रक्रिया प्रचलित है।
शॉपिंग कॉम्प्लेक्स की नीलामी में अनियमितता
[राजस्व]
130. ( क्र. 2808 ) श्री दिनेश राय मुनमुन : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत लखनादौन के द्वारा निर्माणाधीन शॉपिंग कॉम्प्लेक्स बाजार चौक लखनादौन की दुकानों की नीलामी दूषित मानते हुये अनुविभागीय अधिकारी राजस्व लखनादौन को प्रेषित प्रतिवेदन दिनांक 10/01/2024 के तहत निरस्त करने की अनुशंसा की है? यदि हाँ, तो उक्त संबंध में संबंधित अधिकारी के द्वारा प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही की गई है? जानकारी दें। यदि नहीं, की गई है तो क्या कारण है? बतावें। (ख) क्या अनुविभागीय अधिकारी राजस्व लखनादौन के पत्र क्रं/2416 दिनांक 20/12/2023 के आधार पर शॉपिंग कॉम्प्लेक्स रानी दुर्गावती चौक जनपद पंचायत लखनादौन जिला सिवनी को कलेक्टर सिवनी के आदेश क्रमांक 6209 दिनांक 26/03/2024 के तहत शॉपिंग कॉम्प्लेक्स की नीलामी प्रक्रिया को भी दूषित मानते हुये 15 दिवस के भीतर काबिज दुकानदारों को हटाये जाने का आदेश किया गया है? यदि हाँ, तो आदेशों की प्रति उपलब्ध करायें। (ग) प्रश्नांश ''ख'' यदि हाँ, तो प्रश्न दिनांक तक संबंधित अधिकारी के द्वारा किसी प्रकार की कोई कार्यवाही क्यों नहीं की गई? स्पष्ट रूप से बतावें। (घ) प्रश्नांश ''क'' व ''ख'' में उल्लेखित निर्माणाधीन शॉपिंग कॉम्प्लेक्स में नीलामी की प्रक्रिया दूषित पाये जाने के बावजूद संबंधित अधिकारियों के द्वारा कलेक्टर के आदेशों की अवहेलना किये जाने पर दोषी अधिकारियों के विरूद्ध किसी प्रकार की कोई कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ, जनपद पंचायत लखनादौन द्वारा निर्मित शॉपिंग कॉम्पलेक्स बाजार चौक लखनादौन की दुकानों की नीलामी दूषित मानते हुये कार्यालय जनपद पंचायत लखनादौन द्वारा पत्र कमांक-1445 दिनांक 10. 01.2024 के तहत दुकानों की जांच कर जांच प्रतिवेदन अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) लखनादौन की ओर प्रेषित किया गया है। अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) द्वारा पत्र क्रमांक 372 दिनांक 23.02.2024 के माध्यम से जांच प्रतिवेदन जिला पंचायत सिवनी की ओर प्रेषित किया गया है। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता है। (ख) जी हाँ, आदेशों की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) रानी दुर्गावती कॉम्पलेक्स के कब्जाधारियों द्वारा माननीय न्यायालय प्रथम व्यवहार न्यायाधीश वरिष्ठ खण्ड लखनादौन जिला सिवनी पीठासीन अधिकारी सुश्री सुमीत्रा ताहेड़ के न्यायालय में आदेश नियम 39 (1) एवं (2) सी.पी.सी. के तहत दिनांक 05.01.2024 को अपील प्रस्तुत की गई थी। प्रकरण क्र. आर.सी.एस.ए-80/2024 सूरज उर्फ सूर्यप्रकाश पाराशर के प्रकरण में दिनांक 20.05.2024 को अस्थाई निषेधाज्ञा जारी किया गया एवं अन्य प्रकरण क्रमांक-आर.सी.एस.ए. 54/2024 श्री रंजीत साहू एवं प्रदीप राजपूत के प्रकरण में दिनांक 24.04.2024 को आदेश पारित कर अस्थाई निषेधाज्ञा आदेश पारित किया गया। जो प्रश्न दिनांक तक प्रभावशील होने से आगे की कार्यवाही लंबित है। (घ) प्रश्नांश 'क' से संबंधित कार्यवाही प्रचलित है। प्रश्नांश 'ख' से संबंधित प्रकरण व्यवहार न्यायालय प्रथम वर्ग न्यायाधीश लखनादौन में प्रचलित है। प्रकरण न्यायालय में प्रचलित होने से कार्यवाही नहीं की गई है। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता है।
नियुक्तिकर्ताओं के पद में परिवर्तन
[स्कूल शिक्षा]
131. ( क्र. 2811 ) श्री सुनील उईके : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश के स्कूल शिक्षा विभाग में लिपिक वर्गीय कर्मचारियों के नियुक्तिकर्ता अधिकारी संभागीय संयुक्त संचालक लोक शिक्षण बनाये गये हैं? यदि हाँ, तो राजपत्र, कार्यकारी के आदेश की प्रति संलग्न करें। क्या लिपिकों की भर्ती, पदोन्नति का रोस्टर संभागीय स्तर पर संधारित होता है? यदि हाँ, तो संभागीय आरक्षण समिति से अनुमोदित रोस्टर की संभागवार जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) प्रदेश में जब नियुक्तिकर्ता अधिकारी बदल दिये गये हैं तो संभागीय संयुक्त संचालक द्वारा किस रोस्टर का पालन करते हुये सीधी भर्ती, अनुकंपा नियुक्ति, भर्ती की जा रही है? (ग) प्रश्नांश (क) यदि हाँ, तो जिलो से आरक्षण अनुसार रिक्त पदों पर संभागीय स्तर से की जा रही अनुकंपा नियुक्ति में क्या संभागीय रोस्टर का पालन किया गया है? यदि नहीं, तो क्यों? इस हेतु कौन-कौन संयुक्त संचालक लोक शिक्षण दोषी हैं, वे वर्तमान में कहां-कहां पदस्थ है? (घ) प्रश्नांश (ग) के परिप्रेक्ष्य में अभी तक की गई समस्त अनुकंपा नियुक्तियां लिपिकीय पदों की बिना रोस्टर के पालन की कर दी गई है? इस हेतु विभाग दोषी अधिकारी के विरूद्ध क्या कार्यवाही करने जा रहा है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। राजपत्र की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार, जी नहीं, लिपिक संवर्गीय पद जिला स्तरीय होने के कारण आयुक्त, लोक शिक्षण म.प्र. के पत्र क्रमांक/स्था-4/सी-ए/सं.सं. ग्वा.मार्ग./60/2010-2011/212 भोपाल, दिनांक 08.02.2011 के द्वारा भर्ती एवं पदोन्नति का रोस्टर जिला स्तर पर संधारित होता है। (ख) एवं (ग) उत्तरांश ''क'' के अनुक्रम में शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है। (घ) जिला स्तर पर संधारित रोस्टर अनुसार नियुक्तियां की गई है। अत: शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है।
पंचायत एवं ग्रामों का पुनर्गठन
[राजस्व]
132. ( क्र. 2813 ) श्री सुनील उईके : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश की जनता की सुख सुविधाओं के लिए जिला पुर्नगठन आयोग का गठन किया गया है? यदि हाँ, तो जुन्नारदेव विधानसभा में दो नगरपलिका का क्षेत्र आते हैं। जिसमें एक नगरपालिका जुन्नारदेव और दूसरी नगरपालिका दमुआ है तो क्या दमुआ की जनता की सुविधा के लिए दमुआ तहसील का गठन कर पूर्ण दर्जा दिये जाने पर विचार करेंगे? यदि हाँ, तो कब तक? (ख) तामिया में 54 पंचायतें हैं एवं बिछुआ में 50 पंचायतें हैं जो विकासखण्ड हैं, तो क्या इन दोनों विकासखण्ड की तर्ज पर जुन्नारदेव जनपद अंतर्गत 97 पंचायतों को दो भागों में बांटकर जुन्नारदेव एवं दमुआ दो जनपद बनाये जाने पर विचार करेंगे? यदि हाँ, तो कब तक?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। प्रस्ताव आयोग के समक्ष विचाराधीन है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ख) राजस्व विभाग की अधिसूचना क्रमांक E.F.No. 1/11/0001/ 2024/7-4 भोपाल दिनांक 12 मार्च, 2024 के अनुसार मध्यप्रदेश प्रशासनिक इकाई पुनर्गठन आयोग गठित किया गया है। आयोग की अनुशंसा उपरांत शासन इस संबंध में उचित निर्णय ले सकेगा।
नहरों के पानी से वंचित ग्राम
[जल संसाधन]
133. ( क्र. 2816 ) श्री अमर सिंह यादव : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राजगढ़ जिले की विधानसभा राजगढ़ में मोहनपुरा परियोजना से नहरों के माध्यम से ग्रामों में पानी उपलब्ध कराया जा रहा है? यदि हाँ, तो कब से तथा कितने ग्रामों को नामवार सूची दें। (ख) राजगढ़ जिले की विधानसभा राजगढ़ में मोहनपुरा परियोजना से कौन-कौन से ग्राम ऐसे हैं जो नहरों के पानी से वंचित है? नाम सहित जानकारी दें। (ग) उक्त ग्रामों के नहरों के पानी से छूटने का क्या कारण है? (घ) क्या उक्त छूटे हुये ग्रामों में नहरों का पानी उपलब्ध कराया जावेगा? यदि हाँ, तो कब तक और यदि नहीं, तो क्यों नहीं? कारण सहित बतावें।
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी हाँ। विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के "प्रपत्र-अ" अनुसार है। (ख) मोहनपुरा परियोजना से वंचित ग्रामों की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के "प्रपत्र-ब" अनुसार है। (ग) मोहनपुरा परियोजना की स्वीकृति में उक्त ग्राम पूर्व में सम्मिलित नहीं होने के कारण नहरों के पानी से वंचित होना प्रतिवेदित है। (घ) जी हाँ। निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
राजस्व महाभियान में प्राप्त आवेदनों का निराकरण
[राजस्व]
134. ( क्र. 2819 ) श्री सचिन सुभाषचंद्र यादव : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) म.प्र. में राजस्व महाभियान 1.0, 2.0 एवं 3.0 अभियान चलाया गया है? अगर हाँ तो कब-कब विवरण देवें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार 1.0, 2.0 एवं 3.0 अभियान में इंदौर संभाग में नामांतरण, बंटवारा, सीमांकन एवं नक्शा संशोधन के कितने आवेदन प्राप्त हुए? कितनों का निराकरण किया गया? तहसीलदार, नायब तहसीलदार, कोर्टवार विवरण देवें। (ग) खरगोन जिले में नामांतरण, बंटवारा, सीमांकन एवं नक्शा संशोधन के प्रकरण अस्वीकृत किये गये हैं? अगर हाँ तो ग्रामवार, तहसीलदार, नायब तहसीलदार एवं कोर्टवार अस्वीकृति के कारण सहित विवरण देवें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ,
राजस्व महाभियान 1.0 |
15 जनवरी, 2024 से 10 मार्च 2024 तक |
राजस्व महाभियान 2.0 |
18 जुलाई, 2024 से 31 अगस्त 2024 तक |
राजस्व महाभियान 3.0 |
15 नवंबर, 2024 से 26 जनवरी 2025 तक |
(ख) प्रश्नांश (क) अनुसार 1.0, 2.0 एवं 3.0 अभियान में इंदौर संभाग में नामांतरण के 88470 आवेदन प्राप्त हुए जिसमें से 69770 का निराकरण किया गया, बंटवारा के 9472 आवेदन प्राप्त हुए जिसमें से 6762 का निराकरण किया गया, सीमांकन के 8973 आवेदन प्राप्त हुए जिसमें से 6383 का निराकरण किया गया एवं नक्शा संशोधन के 3195867 आवेदन प्राप्त हुए जिसमें से 766087 का निराकरण किया गया। जिला अलीराजपुर की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "एक", जिला बड़वानी की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "दो", जिला बुरहानपुर की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "तीन", जिला धार की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "चार", जिला इन्दौर की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "पांच", जिला झाबुआ की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "छ:'', जिला खण्डवा की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "सात", जिला खरगोन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "आठ" अनुसार है। (ग) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "आठ" अनुसार है।
पिछड़ा वर्ग के चयनित शिक्षकों की नियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
135. ( क्र. 2820 ) श्री सचिन सुभाषचंद्र यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. में 2018 की शिक्षक भर्ती में पिछड़ा वर्ग के 13 प्रतिशत अभ्यर्थियों की नियुक्ति को होल्ड किया गया है? अगर हाँ तो क्यों? कारण स्पष्ट करें। (ख) क्या वित्त विभाग ने इन 13 प्रतिशत होल्ड किये गये अभ्यर्थियों के पदों के लिए कोई बजट स्वीकृत किया है? अगर हाँ तो जानकारी देवें। (ग) ओ.बी.सी. के मेधावी छात्रों का चयन जनरल कैटेगरी (UR) में क्यों नहीं किया जा रहा है? क्या सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में एस.सी., एस.टी. और ओ.बी.सी. के उच्च नंबरों से चयनित अभ्यर्थियों का सिलेक्शन सामान्य वर्ग (UR) में ही किये जाने का निर्णय दिया है? अगर हाँ तो 2018 शिक्षक भर्ती में प्रतिक्षारत आरक्षित वर्गों के अभ्यर्थियों को कब तक नियुक्तियां प्रदान कर दी जाएंगी? (घ) खरगोन जिले में कृषि, कला एवं होम साइन्स विषय की निःशुल्क पाठ्य पुस्तकें विद्यार्थियों को प्राचार्य द्वारा क्रय कर वितरित की जाती है? अगर हाँ तो क्या प्राचार्यों को इसका आवंटन नहीं हुआ है? कारण सहित विवरण देवें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) उच्च माध्यमिक शिक्षक एवं माध्यमिक शिक्षक नियोजन हेतु जारी विज्ञापन दिनांक 29.12.2019 के क्रम में अन्य पिछड़ा वर्ग आरक्षण सें संबंधित विचाराधीन न्यायालयीन प्रकरणों में माननीय उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा पारित अंतरिम आदेशों एवं इस संबंध में सामान्य प्रशासन विभाग के निर्देशों के अनुसार कार्यवाही की गई है। (ख) विज्ञापित पदों के आधार पर वित्त विभाग द्वारा विज्ञापन वर्ष में बजट स्वीकृत किया जाता है। (ग) आरक्षित प्रवर्ग के मेरोटोरियस अभ्यार्थियों का चयन अनारक्षित प्रवर्ग में किया गया है। वर्ष 2018 की पात्रता परीक्षा के आधार पर भर्ती प्रक्रिया पूर्ण हो चुकी है। (घ) जी हाँ। जी नहीं। प्राचार्यों को आवंटन जारी नहीं किया जाता है अपितु संबंधित जिला के जिला शिक्षा अधिकारी को आंवटन जारी किया जाता है। सत्र 2024-2025 हेतु जिले से कोई मांग पत्र प्राप्त नहीं हुआ है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मत्स्य पालन हेतु तालाबों के पट्टे का प्रदाय
[मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास]
136. ( क्र. 2823 ) श्री राजन मण्डलोई : क्या राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बड़वानी जिले अन्तर्गत मत्स्य पालन हेतु कितने तालाब विभाग द्वारा पट्टे पर दिये गये हैं? हितग्राही/समूह के नाम बतावें। इनमें से कितने हितग्राही/समूह द्वारा पट्टे पर प्राप्त तालाबों को ठेके पर दिया गया एवं कितने तालाबों की नियमानुसार रायल्टी प्रश्न दिनांक तक जमा नहीं की गई। (ख) क्या जिन हितग्राही/समूह द्वारा ठेके पर तालाब दिये और उनके द्वारा प्रश्न दिनांक तक रायल्टी जमा नहीं की गई, उनके पट्टे निरस्त करने की कार्यवाही कब तक की जायेगी? (ग) बड़वानी जिले में सब्सिडी प्राप्त तालाब एवं कियोस्क के हितग्राहियों की विगत 03 वर्षों की सूची उपलब्ध करावें। (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार ऐसे कितने हितग्राही हैं जिनके तालाब/कियोस्क का कार्य पूर्ण हो चुका है परन्तु उन्हें सब्सिडी की राशि जारी नहीं गई? (ड.) प्रश्नांश (घ) अनुसार ऐसे कितने तालाब एवं कियोस्क हैं जिनका निर्माण ही नहीं हुआ और सब्सि़डी का आहरण किया गया?
राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास ( श्री नारायण सिंह पंवार ) : (क) बड़वानी जिला अंतर्गत मत्स्य पालन हेतु वर्तमान में 110 तालाब/जलाशय पट्टे पर आवंटित है जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-अ अनुसार। (ख) जानकारी निरंक। (ग) बड़वानी जिलो में अनुदान प्राप्त तालाब/कियोस्क के हितग्राहियों की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-ब अनुसार। (घ) एवं (ड.) जानकारी निरंक है।
रोगी कल्याण निधि का विवरण
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
137. ( क्र. 2826 ) श्री राजन मण्डलोई : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला बड़वानी में रोगी कल्याण निधि का वित्तीय वर्ष 2020-21 से 2024-25 प्राप्त आय एवं व्यय की राशि प्राप्त के वाउचर की प्रति उपलब्ध करायें एवं शासन से कितनी अनुदान राशि प्राप्त हुई? (ख) जिला चिकित्सालय में भर्ती रोगियों को कौन-कौन से खाद्यान्न, पेय पदार्थ का वितरण किया जाता है? वितरण का कार्य किसकी देखरेख में किया जाता है? वितरण से पूर्व खाद्यान्न पेय पदार्थ का परीक्षण किसके द्वारा किया जाता है? (ग) वर्ष 2021 से प्रश्न दिनांक तक कितना व्यय खाद्यान्न, पेय पदार्थ पर किया गया? क्रय सामग्री के देयक की प्रति उपलब्ध करायें। (घ) जिला अस्पताल द्वारा कौन-कौन सी सामग्री क्रय की गई? उसका विवरण एवं देयकों की प्रति उपलब्ध करायें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार। (ख) जिला चिकित्सालय में भर्ती रोगियों को राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, मध्यप्रदेश के पत्र कमांक 8070 दिनांक 26.04.2022 के दिशा-निर्देश एवं डाइट चार्ट अनुसार भोजन प्रदान किया जाता है। वितरण का कार्य डाईटिशियन की देखरेख में किया जाता है। वितरण से पूर्व खाद्यान्न पदार्थ का परीक्षण किये जाने हेतु जिला क्वालिटी एश्योरेंस कमेटी अधिकृत है। पत्र की प्रति जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' (पैन ड्राइव) अनुसार। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''द'' अनुसार।
जिला चिकित्सालय रतलाम के डॉक्टर के विरुद्ध कार्यवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
138. ( क्र. 2833 ) श्री कमलेश्वर डोडियार : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्षेत्र की आम जनता द्वारा लगातार जिला चिकित्सालय रतलाम की अव्यवस्थाओं की शिकायत प्रश्नकर्ता को लगातार प्राप्त हो रही थी जिस कारण प्रश्नकर्ता दिनांक 05/12/2024 को स्वयं का सर्दी जुकाम का इलाज व जिला अस्पताल का औचक निरीक्षण करने जिला चिकित्सालय रतलाम के मरीज वार्ड में मरीजों से मिलकर उनके स्वास्थ्य संबंधी जानकारी लेकर अपने स्वयं के इलाज हेतु इमरजेंसी डॉक्टर ड्यूटी कक्ष क्र. 8 में गया जहाँ पर ड्यूटी डॉक्टर चन्द्र प्रताप सिंह राठोर अपनी कुर्सी पर बिना डॉक्टर ड्रेस के बैठे हुए थे जिनके द्वारा प्रश्नकर्ता को गन्दी गन्दी-गालियां देते हुए जाति सूचक शब्दों का उपयोग करते हुए मुझे यह जानते हुए की प्रश्नकर्ता सैलाना विधानसभा का आदिवासी विधायक है व प्रश्नकर्ता सुरक्षा कर्मी द्वारा भी बताया गया की ये माननीय विधायक साहब हैं आप गाली कैसे दे रहे हो। उसके बावजूद मुझे सार्वजनिक रूप से अपमानित किया गया। मुझे अपमानित कर गाली देने वाले ड्यूटी डॉक्टर के विरुद्ध क्या कार्यवाही की गयी? सम्पूर्ण जानकारी बतावें। (ख) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित ड्यूटी डॉक्टर के विरुद्ध विभागीय रूप से निलंबन की कार्यवाही की गई हैं? यदि हाँ, तो बतावें। यदि नहीं, तो क्यों नहीं? क्या कार्यवाही नहीं करने वाले दोषी अधिकारियों पर कार्यवाही की जावेगी? सम्पूर्ण जानकारी बतावें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) कलेक्टर, रतलाम से प्राप्त रिपोर्ट अनुसार दोनों पक्षों द्वारा एक दूसरे के विरूद्ध की गई रिपोर्ट के आधार पर प्रकरण में एफ.आई.आर. दर्ज कर अनुसंधान में लिया गया है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। उत्तरांश (क) के परिप्रेक्ष्य में शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
नीमच विधानसभा क्षेत्र में मंदिरों का जीर्णोद्धार
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
139. ( क्र. 2836 ) श्री दिलीप सिंह परिहार : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नीमच विधानसभा अंतर्गत विभाग द्वारा 1 जनवरी 2015 के पश्चात किन-किन मंदिरों को कितनी-कितनी राशि, किन-किन कार्यों के लिए आंवटित की गई? सूची उपलब्ध कराएं। (ख) प्रश्नांश (क) संदर्भित प्रश्नकर्ता ने उक्त अवधि में किन-किन मंदिरों के जीर्णोद्धार के लिए कब-कब प्रस्ताव दिए? प्रस्ताव पर किन-किन मंदिरों का जीर्णोद्धार किया गया? (ग) विभागीय स्तर पर प्रदेश के समस्त जिलों में विभाग के आवंटन को लेकर क्या प्रक्रिया अपनाई जाती है? (घ) क्या उप सचिव, धर्मस्व न्यास एवं धर्मस्व विभाग, भोपाल ने अपने पत्र क्रं. 43/2475404/ 2024/68, भोपाल, दिनांक 03.01.2025 को ग्राम पंचायत पालसोडा में स्थित भैसासरी मंदिर के जीर्णोद्धार को लेकर जानकारी चाही थी? इसकी वर्तमान स्थिति से अवगत कराएं।
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट 'अ' अनुसार है। (ख) जानकारी सलंग्न परिशिष्ट 'ब' अनुसार है। (ग) शासन संधारित मंदिरों के जीर्णोद्धार कार्य हेतु आयुक्त के माध्यम से नियमानुसार प्रस्ताव प्राप्त होने पर परीक्षणोपरांत कार्य की औचित्यता एवं बजट की उपलब्धता के आधार पर राशि आवंटित की जाती है। (घ) जी हाँ। विभाग स्तर पर प्रस्ताव अप्राप्त है।
एस.एन.सी.यू. एवं पी.आई.सी.यू. में अनियमितता
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
140. ( क्र. 2840 ) श्री दिलीप सिंह परिहार : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता विधायक के अतारांकित प्रश्न क्रंमाक 1144 दिनांक 18.12.2024 के प्रश्नांश ''घ'' का उत्तर उपलब्ध कराएं। (ख) एस.एन.सी.यू., पी.आई.सी.यू. में बच्चों के लिए 1 जनवरी 2018 से नीमच, मन्दसौर, रतलाम जिले में प्रति माह, प्रति बच्चे पर कुल कितनी राशि खर्च हुई? (ग) प्रश्नांश (क) संदर्भित एस.एन.सी.यू., पी.आई.सी.यू. में विभाग द्वारा प्रति बच्चा, प्रतिदिन कितनी राशि खर्च करने का प्रावधान है। प्रतिदिन बच्चों की इंट्री की जांच किस-किस सक्षम अधिकारी ने की। जांच प्रतिवेदन की छायाप्रति दें। (घ) प्रश्नांश (ग) संदर्भित क्या उक्त जिलों में अधिकारियों की लापरवाही के चलते एस.एन.सी.यू., पी.आई.सी.यू. में फर्जी इंट्री कर रजिस्टर में अनियमितता की जा रही है? ऐसी शिकायत कब-कब किस व्यक्ति ने कहां-कहां के लिए की और विभाग ने उस पर क्या कार्यवाही की? जानकारी दें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) अतारांकित प्रश्न क्रमांक 1144 दिनांक 18.12.2024 के प्रश्नांश ''घ'' के उत्तर की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) एस.एन.सी.यू. एवं पी.आई.सी.यू. में 1 जनवरी 2018 से नीमच, मन्दसौर तथा रतलाम जिले में प्रतिमाह, प्रति बच्चे पर खर्च हुई राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। (ग) बीमारी से ग्रसित बच्चों के उपचार हेतु जननी शिशु सुरक्षा कार्यक्रम अंतर्गत एक वर्ष तक के बच्चों हेतु नि:शुल्क दवा के लिए राशि रूपये 200/- एवं जांच के लिए राशि रूपये 100/- प्रति बच्चे का प्रावधान भारत सरकार द्वारा निर्धारित किया गया है। इसके अतिरिक्त एस.एन.सी.यू्. व पी.आई.सी.यू. के रख-रखाव हेतु आवश्यकता अनुसार पृथक से राशि का प्रावधान है। शेष प्रश्न की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। (घ) जी नहीं। एस.एन.सी.यू., पी.आई.सी.यू. में फर्जी इंट्री कर रजिस्टर में अनियमितता के संबंध में शिकायत निरंक है शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
धार्मिक स्थलों का संरक्षण एवं सौंदर्यीकरण
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
141. ( क्र. 2843 ) श्री दिनेश गुर्जर : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग द्वारा धार्मिक स्थलों का संरक्षण, सौंदर्यीकरण एवं बाउंड्रीवॉल कराए जाने हेतु क्या नियम एवं निर्देश हैं? मुरैना विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत शासन द्वारा कितने धार्मिक स्थल सूचीबद्ध है? (ख) क्या मुरैना विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत समस्त धार्मिक स्थलों की भूमि अतिक्रमण मुक्त है? क्या विभाग समस्त धार्मिक स्थलों की भूमिका सीमांकन कराकर संरक्षित करेगा? (ग) मुरैना विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत ऐसे कितने धार्मिक स्थल हैं जो बाउंड्रीवॉल विहीन है? उक्त धार्मिक स्थलों के संरक्षण एवं सौंदर्यीकरण हेतु विभाग क्या योजना बना रहा है? (घ) मुरैना विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत प्रस्तावित ग्राम नाऊपुरा में क्षेत्रवासियों की आस्था का प्रतीक बाबू महाराज के मंदिर एवं ग्राम रिठौरा अंतर्गत पुराने रेल्वे लाइन के पास हनुमान जी के मंदिर, ग्राम पंचायत कोतवाल दलित बस्ती में विद्या रामदास महाराज जी के मंदिर एवं दानवीर कर्ण की जन्म स्थली की बाउंड्रीवॉल क्यों नहीं कराई जा रही? उचित कारण देवें। उक्त प्रस्तावित मंदिरों/धार्मिक स्थलों की बाउंड्रीवॉल कब तक पूर्ण हो पाएगी?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) विभाग द्वारा शासन संधारित मंदिरों के संरक्षण/जीर्णोद्धार हेतु जिले स्तर से संभागीय आयुक्त के माध्यम से प्रस्ताव प्राप्त होने पर कार्य की उपयोगिता/औचित्यता एवं बजट की उपलब्धता के आधार पर जीर्णोद्धार हेतु राशि स्वीकृत की जाती है। विभाग में धार्मिक स्थलों के सौंदर्यीकरण एवं बाउंड्रीवॉल हेतु पृथक से कोई नियम-निर्देश नहीं है। मुरैना विधानसभा क्षेत्र अन्तर्गत 81 धार्मिक स्थल सूचीबद्ध है। (ख) जी हाँ। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता। (ग) मुरैना विधानसभा क्षेत्र अन्तर्गत 59 धार्मिक स्थल बाउंड्रीवॉल विहीन है। जिले स्तर से संभागीय आयुक्त के माध्यम से प्रस्ताव प्राप्त होने पर कार्य की उपयोगिता/बजट की उपलब्धता के आधार पर राशि जारी की जाती है। उक्त संबंध में शासन स्तर पर पृथक से कोई योजना प्रचलित नहीं है। (घ) प्रश्न में उल्लेखित चारों मंदिर शासन संधारित मंदिर की सूची में दर्ज नहीं होने से बाउंड्रीवॉल नहीं बनायी गयी। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता।
जिला स्तरीय चिकित्सालयों में शव वाहन उपलब्ध कराया जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
142. ( क्र. 2845 ) श्री मुकेश मल्होत्रा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या यह सही है कि चंबल संभाग के शासकीय ब्लॉक स्तरीय और जिला स्तरीय चिकित्सालय में शव वाहनों की व्यवस्था है? यदि हाँ, तो ब्लॉकवार और जिलावार कुल कितने-कितने वाहन उपलब्ध हैं? संख्या बताएं! (ख) क्या यह सही है कि विभाग व सरकार ने चंबल संभाग के ब्लॉक स्तरीय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र और जिला स्तरीय चिकित्सालयों में शव वाहन उपलब्ध कराने के लिए कोई निर्णय लिया है? यदि हाँ, तो जानकारी उपलब्ध करावें। (ग) क्या प्रश्नांश (क), (ख) का उत्तर जनता के हित का है तो क्या विभाग और सरकार प्रदेश की जनता की इस गंभीर समस्या का निराकरण करने के लिए चंबल संभाग के समस्त ब्लॉक स्तरीय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र और जिला स्तरीय चिकित्सालयों एवं में एक-एक शव वाहन उपलब्ध कराने की व्यवस्था करने के लिए निर्णय लेंगे? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं तो क्यों नहीं? कारण बतावें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी हाँ। प्रदेश में शव वाहन के संचालन के संबंध में शासन द्वारा लिये गये निर्णय की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। वर्तमान में प्रदेश में शव वाहन के संचालन हेतु निविदा प्रकिया में चयनित संस्था को कार्यादेश जारी किया गया है। संस्था के साथ नियमानुसार अनुबंध निष्पादन उपरांत प्रदेश में शव वाहन का संचालन प्रारंभ किया जा सकेगा। (ग) जी हाँ। शासन के निर्णय के अनुक्रम में अनुबंधित सेवा-प्रदाता एजेंसी द्वारा चिकित्सा महाविदयालयीन जिलों के जिला स्तरीय चिकित्सालयों में 04 तथा शेष जिलों में 02 शव वाहन उपलब्ध करवाने की योजना है।
अतिथि शिक्षकों का नियमितीकरण
[स्कूल शिक्षा]
143. ( क्र. 2847 ) श्री मुकेश मल्होत्रा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश के हजारों स्कूलों में शिक्षकों की कमी होने के कारण अतिथि शिक्षकों से स्कूलों में अध्यापन का कार्य कराया जा रहा है? यदि हाँ, तो संकुलवार, ब्लॉकवार, जिलावार संख्यात्मक जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) क्या अतिथि शिक्षक संघ ने अपने नियमितीकरण नियुक्ति आदेश जारी करने के लिए कई बार विभाग व सरकार से मांग की गई ज्ञापन पत्र दिए परंतु विभाग व सरकार ने इस दिशा में कोई निर्णय नहीं लिया? यदि हाँ, तो जानकारी प्रदान करावें। (ग) प्रश्नांश (क) का उत्तर सही है तो क्या विभाग व सरकार संपूर्ण मध्यप्रदेश के समस्त स्कूलों में कार्यरत अतिथि शिक्षकों को नियमित कर नियुक्ति आदेश जारी करेंगे? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं तो क्यों नहीं? कारण बतावें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) शासकीय शालाओं में रिक्त पदों के विरूद्ध अतिथि शिक्षकों को आमंत्रित करने का प्रावधान है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ, अतिथि शिक्षकों के नियमितीकरण का सीधे कोई प्रावधान नहीं है। न्यूनतम तीन सत्रों में 200 दिवस जिसमें एक सत्र में न्यूनतम 30 दिवस अध्यापन करने वाले अतिथि शिक्षकों के लिये शिक्षक संवर्ग के सीधी भर्ती के लिये विज्ञापित पदों पर 50 प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान किया गया है। (ग) जी नहीं शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मेडिकल कॉलेज के बजट में कटौती
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
144. ( क्र. 2848 ) श्री सिद्धार्थ सुखलाल कुशवाहा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या चिकित्सा महाविद्यालय सतना में 650 बिस्तरीय चिकित्सा भवन में कैंसर यूनिट का प्रस्ताव निरस्त/कैंसिल कर दिया गया है? उक्त कैंसर यूनिट के निरस्तगी के लिये जो प्रस्ताव/आदेश जारी किया गया है, उसकी एक प्रति उपलब्ध करायें। (ख) क्या आयुक्त चिकित्सा शिक्षा विभाग सतपुड़ा भवन भोपाल को 423.59 करोड़ का पुनरीक्षित प्राक्कलन प्रशासकीय स्वीकृति के लिये प्रमुख अभियंता (भवन) लोक निर्माण विभाग भोपाल ने माह दिसम्बर 2024 को भेजा था? उक्त पत्र की एक प्रति उपलब्ध कराते हुये बतायें कि कितनी राशि की प्रशासकीय स्वीकृति चिकित्सा शिक्षा विभाग ने प्रश्न तिथि तक जारी की है? जारी प्रशासकीय स्वीकृति के पत्र/आदेशों की एक प्रति उपलब्ध करायें। (ग) क्या शासन चिकित्सा महाविद्यालय सतना में कैंसर यूनिट को पूरी तरह निरस्त कर चुका है? अगर नहीं तो 100 करोड़ रूपयों से ज्यादा की राशि की कटौती किस नोटशीट पर किस-किस नाम/पदनाम के द्वारा क्या-क्या टिप्पणियों पर किसके अंतिम आदेश/स्वीकृति के बाद की गई? सभी नोटशीटों/टिप्पणियों सहित एक-एक प्रति जारी आदेशों सहित उपलब्ध करायें। (घ) क्या सतना जिले में कैंसर मरीजों का डाटा (रिकार्ड) सरकार के पास है? यदि हाँ, तो कितनी संख्या में कैंसर मरीज हैं, नामवार सूची दें? (ड.) क्या सतना जिले के किसी सरकारी अस्पताल में जिले के कैंसर मरीजों के इलाज/दवाइयों की व्यवस्था/सुविधा उपलब्ध है? यदि नहीं, तो क्यों? यदि हाँ, तो कौन-कौन से सरकारी अस्पताल में क्या-क्या सुविधायें/इलाज दिया/किया जा रहा है? सूची दें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी नहीं, वर्तमान में 650 बिस्तरीय चिकित्सा भवन के निर्माण स्वीकृति का प्रस्ताव प्रक्रियाधीन है। अतः शेष प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता हैl (ख) जी हाँ। आज दिनांक तक प्रशासकीय स्वीकृति जारी नहीं की गयी है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश (क) के परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी हां। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। 117 कैंसर मरीज है। (ड.) जी हाँ। जिला चिकित्सालय सतना में कैंसर के रोगियों हेतु, कीमोथैरेपी यूनिट (2 बिस्तरीय, डे-केयर) संचालित है। जहां पर कैंसर रोग विशेषज्ञ द्वारा सलाह लेकर आए हुए रोगियों को कीमोथैरेपी दी जाती है। इसके लिए वर्तमान में 17 प्रकार की कीमोथैरेपी दवाएं उपलब्ध है। इसके अतिरिक्त कैंसर के मरीजों को पैलियेटिव केयर की सुविधा भी उपलब्ध है।
सातनारी जलाशय का निर्माण
[जल संसाधन]
145. ( क्र. 2851 ) श्री मधु भगत : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जल संसाधन विभाग द्वारा परसवाड़ा विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत सातनारी जलाशय के निर्माण कार्य पूर्ण करने की समयावधि क्या थी, वर्तमान में कार्य की प्रगति क्या है? अवगत करायें। (ख) निविदाकार द्वारा समयावधि में कार्य पूर्ण न कराये जाने पर विभाग द्वारा निविदाकार पर क्या कार्यवाही की गई? की गई कार्यवाही के समस्त दस्तावेज उपलब्ध करावें। (ग) सातनारी जलाशय निर्माण कार्य का कितना-कितना भुगतान निविदाकार को कर दिया गया? माप पुस्तिका राहित भुगतान किये गये वाउचरों की छायाप्रति उपलब्ध करायें। (घ) सातनारी जलाशय निर्माण में वन विभाग द्वारा भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही वर्तमान में किस स्थिति में है? साथ ही विभाग द्वारा कब तक कार्यवाही की जावेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) सातनारी जलाशय पूर्ण करने की समय वृद्धि सहित समयावधि दिनांक 02.10.2024 तक थी एवं दिनांक 02.06.2025 तक समय वृद्धि की कार्यवाही मुख्य अभियंता स्तर पर प्रक्रियाधीन होना प्रतिवेदित है। वर्तमान में जलाशय का शीर्ष कार्य 10 प्रतिशत एवं नहर कार्य 60 प्रतिशत पूर्ण किया जाना प्रतिवेदित है। (ख) वन विभाग से वन भूमि में कार्य करने की अनुमति नहीं मिलने के कारण निविदाकार द्वारा शेष कार्य संपादित नहीं किया जा सका है। अतः निविदाकार के विरुद्ध कार्यवाही करने का प्रश्न ही नहीं उठता। (ग) सातनारी जलाश्य के अंतर्गत निविदाकार को अनुबंधित राशि रू. 297.92 लाख के विरुद्ध रु. 63.65 लाख का भुगतान किया जाना प्रतिवेदित है। माप-पुस्तिका सहित भुगतान किये गये व्हाउचरों की छायाप्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-1 एवं ''2" अनुसार है। (घ) स्टेज-2 की स्वीकृति की प्रत्याशा में कुल 53.4 हेक्ट. में से 33.36 हेक्ट. गैर वनभूमि ग्राम पाण्डेवाडा में दिनांक 05.04.2023 को कलेक्टर बालाघाट द्वारा हस्तांतरित की जा चुकी है तथा 20.04 हेक्ट. गैर वनभूमि ग्राम कनारी में दिनांक 20.02.2023 को हस्तांतरित की गई थी, किन्तु अतिक्रमण होने के कारण पुनः 29.10.2024 को 20.00 हेक्ट. राजस्व भूमि ग्राम मोतेगांव ग्राम पंचायत कनारी में आवंटित किया जाना प्रतिवेदित है। वन भूमि हस्तानान्तरण की कार्यवाही प्रक्रियाधीन होना प्रतिवेदित है।
मध्यप्रदेश में डिप्टी कमिश्नर के रिक्त पदों पर नियुक्ति
[परिवहन]
146. ( क्र. 2854 ) श्री प्रेमशंकर कुंजीलाल वर्मा : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश में कहां-कहां डिप्टी कमिश्नर के पद रिक्त हैं? (ख) कितने संभागों में डिप्टी कमिश्नर नियुक्त हैं एवं कितने संभागों में डिप्टी कमिश्नर नियुक्त नहीं हैं? (ग) बिना डिप्टी कमिश्नर के स्थाई परमिट कैसे बनेंगे? (घ) डिप्टी कमिश्नर के रिक्त पदों पर कब तक नियुक्ति की जावेगी?
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) मध्यप्रदेश परिवहन विभाग में 10 संभागीय उप परिवहन आयुक्त के स्वीकृत पद रिक्त हैं। मध्यप्रदेश शासन, सामान्य प्रशासन विभाग के आदेश क्रमांक पी-1033819/2022/2/एक, दिनांक 30.12.2022 द्वारा श्री राजेश राठौड, अपर कलेक्टर जिला इंदौर को अस्थायी रूप से आगामी आदेश पर्यंत अपने वर्तमान कर्त्तव्यों के साथ-साथ संभागीय उप परिवहन आयुक्त, इंदौर का प्रभार अतिरिक्त रूप से सौंपा गया। आदेश की प्रति संलग्न परिशिष्ट-अ अनुसार है। (ख) जानकारी उत्तरांश (क) अनुसार। (ग) प्रादेशिक परिवहन प्राधिकरण के कृत्यों के समय-सीमा में निष्पादन तथा इस कार्य हेतु उत्तरदायित्व निर्धारण के लिये मध्यप्रदेश राजपत्र (असाधारण) दिनांक 20.02.2025 में प्रकाशित अधिसूचना जारी कर राज्य शासन द्वारा प्रदेश के 10 राजस्व संभागों में पदस्थ आयुक्त, राजस्व संभाग को एकल सदस्यीय प्रादेशिक परिवहन प्राधिकरण गठन किया गया। अधिसूचना की प्रति संलग्न परिशिष्ट-ब अनुसार है। (घ) समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
दौड़ी माइक्रो उद्वहन सिंचाई योजना
[जल संसाधन]
147. ( क्र. 2855 ) श्री प्रेमशंकर कुंजीलाल वर्मा : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी मालवा विधानसभा क्षेत्र में स्थित तवा डैम से दौड़ी माइक्रो उद्वहन सिंचाई योजना कब स्वीकृत की गई? तारीख और वर्ष बताएं। (ख) इस योजना से केसला विकासखंड के कितने ग्रामों के कितने कृषकों को कितने रकबे में सिंचाई का लाभ मिलेगा? (ग) क्या योजना का कार्य शुरू हो गया है एवं कब तक पूर्ण कर लिया जावेगा? (घ) केसला विकासखंड के और शेष कितने ग्रामों को इस योजना से सिंचाई का लाभ मिलेगा?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) सिवनी-मालवा विधान सभा क्षेत्र में स्थित तवा डेम से दौड़ी (देवरी) माइक्रो उद्वहन सिंचाई योजना की दिनाँक 05/11/2023 के द्वारा स्वीकृति प्रदान की गई है। (ख) इस योजना से केसला विकासखण्ड के 35 ग्रामों के 11, 250 कृषकों को 7, 500 हेक्टेयर में सिंचाई का लाभ मिलना प्रतिवेदित है। (ग) जी नहीं। निविदा प्रक्रियाधीन है, निविदा खुलने के उपरांत एजेंसी निर्धारण के पश्चात कार्य प्रारंभ किया जा सकेगा, कार्य पूर्ण करने की समयावधि अनुबंध के दिनाँक से 36 माह प्रतिवेदित है। (घ) निविदा निर्धारण अनुसार विस्तृत सर्वेक्षण कर इस योजना से वास्तविक लाभांवित होने वाले ग्रामों का निर्धारण संभव है। वर्तमान में बताया जाना संभव नहीं है।
खदानों हेतु भूमि का अधिग्रहण
[राजस्व]
148. ( क्र. 2857 ) डॉ. विक्रांत भूरिया : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि प्रदेश के आदिवासी ब्लॉक में मेजर खनिज के लिए संचालन हेतु वर्ष 2020 से 2025 तक प्रति ब्लॉक और ग्राम पंचायत में कितनी भूमि का अधिग्रहण किया गया और कितनी भूमि की अधिग्रहण की प्रक्रिया जारी है? संपूर्ण जानकारी खदान का नाम, खनिज का नाम, ग्राम पंचायत का नाम, जिस फर्म, कंपनी के लिए भूमि अधिग्रहित की गयी, की जा रही है? उनकी जानकारी देवें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : जिला शहडोल की जानकारी संलग्न परिशिष्ट 'अ' अनुसार है। जिला अनूपपुर की जानकारी संलग्न परिशिष्ट 'ब' अनुसार है। अन्य शेष जिलों की जानकारी निरंक है।
शासन संधारित मंदिरों की सम्पत्ति
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
149. ( क्र. 2863 ) श्री दिनेश जैन बोस : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र क्र. 213 के अंतर्गत कुल कितने मंदिर शासकीय मंदिरों के रूप में दर्ज हैं, इनकी कुल संपत्ति किस प्रकार नगद/एफ.डी. या अन्य के रूप में दर्ज है? उक्त मंदिरों हेतु जिला कलेक्टर को कब-कब, किस-किस मंदिर के जीर्णोद्धार एवं अन्य कार्यों हेतु पंचायतों एवं समितियों द्वारा जनवरी 2015 से प्रश्न दिनांक तक अवगत कराया गया है? पत्र दिनांक सहित की गई कार्यवाही की जानकारी छायाप्रतियों सहित देवें। (ख) विभाग द्वारा किन-किन मंदिरों के जीर्णोद्धार हेतु कब-कब, कितनी-कितनी राशि प्रदान की गई है? विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत कितने शासकीय मंदिरों के प्रस्ताव विभाग के पास किन-किन कारणों से कहां-कहां लंबित है? संपूर्ण विवरण देवें। इन्हें राशि कब तक उपलब्ध करा दी जायेगी? (ग) विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत शासन द्वारा संधारित मंदिरों की दर्ज कृषि भूमियों के क्षेत्रफल एवं स्थान सहित मानदेय प्राप्त पुजारियों के नाम सहित सम्पूर्ण विवरण देवें। उक्त कृषि भूमियों की नीलामी कब-कब, किस-किस को कितनी-कितनी राशि में की गई? संपूर्ण विवरण वर्षवार, मंदिरवार देवें।
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) विधानसभा क्षेत्र क्रमांक 213 अंतर्गत कुल 422 शासन संधारित मंदिर हैं। मंदिरों की भूमि, बैंक खातों में जमा राशि/एफ.डी. या अन्य जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। कलेक्टर जिला उज्जैन से प्राप्त जानकारी अनुसार विधानसभा क्षेत्र क्रमांक 213 अंतर्गत कुल 422 मंदिरों में से 30 मंदिरों के जीर्णोद्धार प्रस्ताव तकनीकी स्वीकृति हेतु जिला स्तर पर है। (ख) विभागीय आदेश क्रमांक एफ 2-3/2020/68, दिनांक 25/09/2023 द्वारा वित्तीय वर्ष 2023-24 में निम्नांकित मंदिरों के जीर्णोद्धार कार्य हेतु राशि स्वीकृत हुई है:- 1. श्री नारायणा धाम (कृष्ण सुदामा मंदिर मित्र मण्डल) तहसील महिदपुर - रूपये 11,35,000/-, 2. बाबा रामदेव मंदिर, पाताखेड़ी, तहसील महिदपुर - रूपये 10,00,000/-, 3. श्री राम मंदिर, महिदपुर तहसील महिदपुर - रूपये 10,00,000/- एवं 4. बड़ा श्री राम मंदिर झारडा, जनपद पंचायत महिदपुर - रूपये 20,00,000/- के स्वीकृति आदेश जारी किये गये हैं। प्रश्नांश 'क' के परिप्रेक्ष्य में शासन स्तर पर प्रस्ताव प्राप्त नहीं होने से शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत किसी भी मंदिर की भूमि की नीलामी नहीं हुई है।
नायब तहसीलदारों के रिक्त पदों की पूर्ति
[राजस्व]
150. ( क्र. 2864 ) श्री दिनेश जैन बोस : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत कुल कितने तहसीलदार/नायब तहसीलदार के पद स्वीकृत हैं? कितने पदों पर तहसीलदार/नायब तहसीलदार कार्यरत हैं? नाम, पदनाम सहित विवरण देवें। नायब तहसीलदारों के रिक्त पदों की पूर्ति हेतु नवीन नियुक्तियां की गई हैं? यदि हाँ, तो कब तक उन्हें पदभार सौंपा जायेगा? यदि नहीं, तो क्यों। (ख) क्या नामांतरण, बंटवारे, सीमांकन के मामले के निराकरण नायब तहसीलदारों की कमियों के कारण लंबित है? यदि हाँ, तो विभाग द्वारा रिक्त पदों पर नायब तहसीलदारों की नियुक्ति कर पदभार सौंप दिया जायेगा? (ग) क्या तहसील महिदपुर अंतर्गत राजस्व मामलों के निराकरण हेतु तीन न्यायालय एवं तहसील झारड़ा अंतर्गत दो न्यायालय स्थित है? यदि हाँ, तो बताएं की क्या एक ही तहसीलदार द्वारा दो-दो तहसील न्यायालयों का कार्य किया जा रहा है? विगत दो वर्षों से कितने प्रकरण नामांतरण, बंटवारें, सीमांकन के लंबित हैं? कब तक नायब तहसीलदारों को पदभार दिया जाकर लंबित राजस्व मामलों का निराकरण कर दिया जायेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) विधानसभा क्षेत्र महिदपुर अंतर्गत तहसीलदार/नायब तहसीलदार के कुल 07 पद स्वीकृत हैं। जिनमें से 04 पद भरे हैं। 1. श्री अनिरूद्ध मिश्रा, तहसीलदार 2. श्री गोवर्धन राजोरिया, प्र. नायब तहसीलदार 3. श्री शौकत अली, प्र. तहसीलदार 4. श्री देवेश गोखले, नायब तहसीलदार, जिले में 05 नायब तहसीलदारों की नियुक्तियाँ वर्ष 2024 में की गई है। नव नियुक्त नायब तहसीलदारों को राजस्व न्यायालयों का प्रभार उनके द्वारा विभागीय परीक्षा उत्तीर्ण करने के पश्चात दिया जावेगा। (ख) नायब तहसीलदारों की कमी के कारण नामांतरण बंटवारे, सीमांकन के मामले लंबित नहीं हैं। (ग) हाँ, तहसील महिदपुर में 03 न्यायालय स्थित है तथा तहसीलदार द्वारा 02 न्यायालयों का कार्य किया जा रहा है, विगत 02 वर्षों के नामांतरण, बंटवारा, सीमांकन के लंबित प्रकरणों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। हाँ, तहसील झारडा अंतर्गत पृथक-पृथक न्यायालय के लिये तहसीलदार एवं नायब तहसीलदार पदस्थ है। विगत दो वर्षों से नामांतरण एवं सीमांकन के कोई भी प्रकरण लंबित नहीं है।
आय से अधिक संपत्ति की जाँच
[परिवहन]
151. ( क्र. 2866 ) श्री महेश परमार : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभाग के पास ख़ुद के कितने कर्मचारी/अधिकारी हैं? कितने प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत हैं? सबकी सूची वर्तमान पद और कार्यस्थल सहित उपलब्ध कराएं। (ख) पूर्व कांस्टेबल सौरभ शर्मा के पूरे कार्यकाल में उसकी पोस्टिंग कहां-कहां की गई थी? पोस्टिंग के स्थान, हर पोस्टिंग की अवधि और उसकी रिपोर्टिंग किस अधिकारी को थी? उनका नाम व उनकी वर्तमान पोस्टिंग का विवरण देवें। (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार सौरभ शर्मा की नियुक्ति से लेकर प्रश्न दिनांक तक प्रदेश में परिवहन आयुक्त कौन-कौन रहे? उनका नाम, उनका संवर्ग एवं पद पर रहने की अवधि की जानकारी के साथ उनकी वर्तमान पदस्थापना भी बताएं। (घ) भ्रष्टाचार को रोकने के लिए वर्तमान में परिवहन चौकियों पर जांच की प्रक्रिया पूर्व की प्रक्रिया से कैसे भिन्न है? विस्तार से बताएं। (ड.) वर्तमान में विभाग के किस-किस कर्मचारी/अधिकारी के विरुद्ध विभागीय या अन्य एजेंसियों के द्वारा भ्रष्टाचार की जाँच चल रही है? सबका विवरण जाँच की वर्तमान स्थिति के साथ देवें। (च) क्या इतने वर्षों से परिवहन विभाग के किसी भी आयुक्त एवं जिम्मेदार अफसर शासन के नियमों की अवैध वसूली के किसी भी प्रकरण की मॉनिटरिंग नहीं कर सके? क्या इस संबंध में दोषी भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों को अवॉर्ड छीन कर निलंबित किया जायेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) परिवहन विभाग में पदस्थ अधिकारियों की सूची उनके वर्तमान पद एवं कार्यस्थल की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। परिवहन विभाग में पदस्थ कर्मचारियों की सूची उनके वर्तमान पद एवं कार्यस्थल की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत अधिकारियों एवं कर्मचारियों की सूची उनके वर्तमान पद एवं कार्यस्थल की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ई'' अनुसार है। (घ) पूर्व में प्रदेश की अन्तर्राज्यीय सीमाओं पर स्थाई रूप से स्थापित परिवहन जांच चौकियों पर पदस्थ अमले द्वारा निरंतर वाहनों की चेकिंग उक्त स्थाई स्थान पर रहकर की जाती थी, जिसमें प्रत्येक वाहन को चेक पोस्ट पर रूककर अपने वाहन तथा प्रपत्रों की जांच कराना पड़ती थी। इस कार्यवाही में उनका काफी समय खर्च होता था। वर्तमान में संचालित किये जा रहे चैंकिंग पॉइंट का कोई स्थाई स्थान निर्धारित न होने से चेक पॉइंट पर पदस्थ अमले द्वारा अपने क्षेत्राधिकार के अंतर्गत राष्ट्रीय/ राजकीय मार्गों पर विभिन्न स्थानों पर आवश्यकता अनुसार चेकिंग पॉइंट लगाकर वाहनों की चेकिंग की जाती है। (ड.) परिवहन आयुक्त कार्यालय में उपलब्ध अभिलेखानुसार कर्मचारी/अधिकारी के विरुद्ध विभागीय या अन्य एजेंसियों के द्वारा भ्रष्टाचार की चल रही जाँच की अद्यतन स्थिति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''फ'' अनुसार है। (च) परिवहन विभाग के सक्षम अधिकारियों द्वारा नियमों के विरूद्ध अवैध वसूली के संबंध में प्राप्त होने वाली शिकायतों की नियमानुसार जाँच की जाकर विधि सम्मत कार्यवाही की जाती है तथा ऐसे प्रकरणों की निरंतर मॉनिटरिंग की जाती है। जिसके परिप्रेक्ष्य में शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पर्यटन को बढ़ावा देने हेतु सुविधाओं का उन्नयन
[पर्यटन]
152. ( क्र. 2872 ) श्रीमती रीती पाठक : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सीधी विधानसभा अंतर्गत प्रश्नकर्ता द्वारा सरकार से गोपाल दास बांध में पर्यटन सुविधाओं के उन्नयन एवं सौंदर्यीकरण, गोपाल दास बांध के किनारे स्थित जल संसाधन विभाग के रेस्ट हाउस को अपने आधिपत्य में लेकर सुविकसित करने तथा गोपाल दास बांध पर सुव्यवस्थित रिज़ॉर्ट स्थापित करने, नौका विहार प्रारंभ करने, ग्राम पंचायत कुर्रवाह में सोन नदी के तट पर मेला स्थल पर एक वृहद इको पार्क स्वीकृत करने इसके अलावा ग्राम पंचायत मौहार में अवस्थित नीलकंठ स्वामी मंदिर और ग्राम पंचायत बढ़ौरा में अवस्थित शिव मंदिर का उन्नयन कर तीर्थ स्थल के रूप में विकसित करने आदि की मांग प्रश्नकर्ता द्वारा की गई थी? क्या इन मांगों के साथ-साथ सरकार द्वारा चिन्हित पर्यटन स्थलों को जोड़ते हुए पर्यटन सर्किट के रूप में विकसित करने की सरकार की कोई योजना है? (ख) सीधी जिले में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए सरकार द्वारा वर्तमान में क्या-क्या कार्य किये जा रहे हैं व आगामी कार्य योजना क्या है?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। वर्तमान में कोई योजना विचाराधीन नहीं है। (ख) 1. ग्राम परसिली एवं बुधारीटोला जिला सीधी स्थित भूमि को पर्यटन नीति अंतर्गत पर्यटन परियोजनाओं की स्थापना कर संचालन हेतु निजी निवेशकों को सौंपी गई है। 2. सीधी जिले में बाइकिंग इवेन्ट Riders in the wild के दौरान बनास नदी पर परसिली रिसोर्ट के पीछे से 4 k.m. लंबा एक दिवसीय Barefoot Sand Trekking रूट विकसित किया गया। 3. वर्ष 2019 में इंडिया हाइक के माध्यम से सीधी जिले में जामधर गेट से नारायण घाटी, सेहरा डेम से करवाही ग्राम तक 30 k.m. का तीन दिवसीय ट्रेकिंग रूट विकसित किया गया। 4. सीधी जिले में ग्रामीण पर्यटन योजनातंर्गत ग्राम खोखरा, थाडीपाथर एवं बकवा सम्मिलित है। उक्त ग्रामों में 09 होमस्टे निर्मित किये गए हैं तथा 06 निर्माणाधीन हैं।
दोषियों के विरूद्ध कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
153. ( क्र. 2873 ) श्री सुरेश राजे : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या पत्र क्रमांक 1, दिनांक 20/09/2024 को श्री लक्ष्मीनारायण जाटव संभागीय वरिष्ठ उपाध्यक्ष अजाक्स संभाग ग्वालियर के द्वारा अतिशेष शिक्षकों की काउंसिलिंग के विषय में ग्वालियर सांसद श्री भारत सिंह कुशवाह के माध्यम से कलेक्टर ग्वालियर को पत्र दिया था? जिसमें कलेक्टर ग्वालियर द्वारा अपने पत्र क्रमांक 0157, दिनांक 06/11/24 को जिला शिक्षा अधिकारी ग्वालियर को जांच हेतु लिखा गया था? पत्र की छायाप्रति उपलब्ध करावें। पत्र दिनांक से प्रश्न दिनांक तक क्या-क्या कार्यवाही की गई? क्या पत्र में उल्लेखित चार बिन्दुओं में से कोई दोषी पाया गया? यदि हाँ, तो दोषियों के विरुद्ध कोई कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों? (ख) क्या शुभम शर्मा द्वारा जिला शिक्षा अधिकारी ग्वालियर श्री अजय कटियार के विरुद्ध न्यायलय में कोई मुकदमा चलाया गया? इसका पूर्ण विवरण देवें। क्या इतने गंभीर मुकदमे के बाद श्री अजय कटियार को ग्वालियर जैसे महत्वपूर्ण जिले का जिला शिक्षा अधिकारी बनाये रखना नियमानुसार उचित है? यदि नहीं, तो इनको कब तक हटाया जायेगा? (ग) श्री अजय कटियार के विरुद्ध दिनांक 1 जनवरी, 2024 से प्रश्न दिनांक तक किन-किन शिकायतकर्ता द्वारा क्या-क्या शिकायतें की गई? शिकायतकर्ताओं के नाम, पत्र की छायाप्रति एवं प्रश्न दिनांक तक क्या-क्या कार्यवाही की गई?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) श्री लक्ष्मीनारायण जाटव संभागीय वरिष्ठ उपाध्यक्ष अजाक्स संभाग ग्वालियर के द्वारा अतिशेष शिक्षकों की काउंसिलिंग के विषय में ग्वालियर सांसद श्री भरत सिंह कुशवाह के माध्यम से कलेक्टर ग्वालियर को दिनांक 20.09.2024 को पत्र प्रस्तुत नहीं किया गया, अपितु दिनांक 20.10.2024 को प्रस्तुत किया गया। जी हाँ। पत्र की छायाप्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''01'' अनुसार है। जिला शिक्षा अधिकारी ग्वालियर के पत्र कमांक- 1450, दिनांक 08.02.2025 द्वारा कलेक्टर ग्वालियर को प्रेषित जांच प्रतिवेदन का परीक्षण मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत जिला ग्वालियर द्वारा कराया जा रहा है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी नहीं। अतः शेषाशं का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''02'' अनुसार है।
शिक्षा विभाग अंतर्गत संचालित मोबाइल ऐप का विवरण
[स्कूल शिक्षा]
154. ( क्र. 2879 ) श्री विपीन जैन : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शिक्षा विभाग द्वारा वर्तमान में कितने मोबाइल ऐप संचालित किये जा रहे हैं? संचालित ऐप का नाम, प्रारंभ वर्ष और उन ऐप के अंदर कौन-कौन सी सुविधाएं, कार्य करवाए जा रहे हैं? उसका विवरण देवें। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लिखित मोबाइल ऐप किस कंपनी द्वारा अद्यतन/मेंटेनेंस/ संचालित किये जा रहे हैं और मोबाइल ऐप प्रारंभ वर्ष से उन्हें कितना-कितना भुगतान किया जा चुका है? (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित मोबाइल ऐप वर्तमान में मध्यप्रदेश के कितने शिक्षक और विभाग अंतर्गत कर्मचारियों ने डाउनलोड कर रखा है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) से (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
जमीनों एवं मकानों का अधिग्रहण
[राजस्व]
155. ( क्र. 2881 ) श्री रामनिवास शाह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) एन.टी.पी.सी. रिहंद नगर बीजपुर सोनभद्र उ.प्र. द्वारा एम.जी.आर. रेल्वे लाइन द्वारा म.प्र. के सिंगरौली जिले में किन-किन ग्रामों की जमीनों एवं मकान का अधिग्रहण किया है? (ख) कितने विस्थापितों को प्लाट, रोजगार, नौकरी एवं अन्य कितने लोगों को दिया गया है? (ग) विस्थापित हुये हितग्राहियों के लिये सी.एस.आर. मद से क्या-क्या रोजगार उपलब्ध कराये गये हैं? (घ) कितनी विस्थापित समितियां कार्य कर रही हैं तथा प्रत्येक समिति में कार्यरत लोगों की सूची उपलब्ध करावें। (ड.) विस्थापितों को क्या-क्या मूलभूत एवं अन्य सुविधायें उपलब्ध करायी गई हैं?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) एन.टी.पी.सी. रिहन्द नगर बीजपुर सोनभद्र उ.प्र. द्वारा एम.जी.आर. रेल्वे लाइन हेतु म.प्र. के सिंगरौली जिले के 16 ग्रामों में जमीनों एवं मकान का अधिग्रहण किया गया है। जो निम्नानुसार है :-
क्रमांक |
ग्राम का नाम |
1 |
गोभा |
2 |
सुइडीह |
3 |
चरगोड़ा |
4 |
खटखरिया |
5 |
करौटी |
6 |
ओरगाई |
7 |
शासन |
8 |
टूशाखांड़ |
9 |
गनियारी |
10 |
बलियरी |
11 |
ढोटी |
12 |
गहिलगढ़ |
13 |
देवरा |
14 |
कचनी |
15 |
माजन खुर्द |
16 |
माजन कला |
(ख) लगभग 950 से अधिक लोगों को संविदा, समितियों एवं अन्य माध्यमों से रोजगार उपलब्ध कराया गया है। मध्यप्रदेश के सिंगरौली जिले में अधिग्रहित भूमि एवं प्लॉट वितरण से संबंधित सभी मदों में मुआवजा एवं अन्य राशियों का भुगतान एन.टी.पी.सी. रिहंद द्वारा मध्यप्रदेश शासन को किया जा चुका है। (ग) एन.टी.पी.सी. रिहंद सी.एस.आर. विभाग विस्थापित हुए ग्रामीणों एवं संबंधित ग्रामों में सामाजिक विकास एवं उत्थान हेतु कार्य करता है, जैसे गांवों में स्ट्रीट लाइट लगवाना, सड़क, नाली आदि बनवाना तथा ग्रामीणों को जीविकोपार्जन हेतु विभिन्न प्रकार के प्रशिक्षण दिलाकर उनको आत्मनिर्भर बनाना है। (घ) एन.टी.पी.सी. रिहंद में (11+2) समितियों/विस्थापितों के माध्यम से लगभग 250 विस्थापित व्यक्तियों को एम.जी.आर. रेल्वे लाइन में समिति के माध्यम से कार्य दिया गया है। समितियों एवं कार्यरत लोगों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ड.) विस्थापितों को निम्न मूलभूत एवं अन्य सुविधायें उपलब्ध करायी गई है :- 1. एन.टी.पी.सी. रिहंद नगर बीजपुर से लेकर बैढ़न, सिंगरौली, मध्यप्रदेश तक दो लेन आर.सी.सी. सड़क का निर्माण कराया गया है। 2. मेडिकल कैंप लगाकर नि:शुल्क चिकित्सा परीक्षण किया जाता है तथा ग्रामीणों को स्वास्थ्य एवं सफाई की जानकारी उपलब्ध कराई जाती है। 3. बच्चों के सर्वांगीण विकास हेतु विद्यालयों में स्कूल भवन, पानी की व्यवस्था, शिक्षण सामाग्री एवं समय-समय पर प्रशिक्षण कार्यक्रम कराये जाते हैं। 4. कक्षा 10 एवं 12 पास विद्यार्थियों को प्रोत्साहन हेतु प्रत्येक वर्ष उत्कर्ष स्कॉलरशिप की व्यवस्था की गयी है। 5. उच्च शिक्षा हेतु विद्यालयों में टैब लैब का स्थापना किया गया है। 6. ग्रामों में पीने की पानी के लिए हैंडपंप लगवाए गये हैं। 7. बच्चों, महिलाओं एवं पुरूषों हेतु प्रत्येक ग्राम में गतिमान अस्पताल की व्यवस्था की गयी है, जिसमें डॉक्टर एवं दवाई की नि:शुल्क सुविधा दी जाती है।
शासकीय सेवकों के विरूद्ध शिकायतें
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
156. ( क्र. 2882 ) श्री राजेन्द्र मेश्राम : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि पिछले पांच वर्षों में लोकायुक्त एवं ई.ओ.डब्ल्यू. में लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा विभाग के भोपाल संभाग में किन-किन शासकीय सेवकों के खिलाफ शिकायतें प्राप्त हुई एवं लोकायुक्त एवं ई.ओ.डब्ल्यू. द्वारा स्वास्थ्य विभाग को भेजे गए पत्रों पर आज दिनांक तक क्या कार्रवाई की गई और यदि नहीं, की गई तो कब तक की जायेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : लोकायुक्त संगठन से प्राप्त जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है तथा ई.ओ.डब्ल्यू. से प्राप्त जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है, जिसमें भोपाल संभाग की जानकारी समाहित है।
चिकित्सालयों में रोगी कल्याण निधि से आय एवं व्यय
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
157. ( क्र. 2884 ) श्री राजेश कुमार वर्मा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पन्ना जिले के समस्त शासकीय चिकित्सालयों में रोगी कल्याण निधि की राशि का वित्तीय वर्ष 2020-21 से वित्तीय वर्ष 2024-25 तक के आय एवं व्यय की राशि के ब्यौरा देवें। (ख) पन्ना जिले में स्वास्थ्य केन्द्र में कण्डम की गई सामग्री के विक्रय की अनुमति ली गई है? यदि हाँ, तो प्रति उपलब्ध करायें। विक्रय की राशि कितनी एवं कहां जमा की गई? विक्रय करने की निविदा सूचना प्रकाशित की गई है? यदि हाँ, तो उसकी प्रति उपलब्ध करायें। क्या इसकी जाँच कराई जाकर दोषियों के खिलाफ कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक? समय-सीमा बतायें। (ग) पन्ना जिले में कितने नियमित, संविदा, आउटसोर्स चिकित्सक कहाँ-कहाँ पदस्थ हैं? सूची उपलब्ध करावें। क्या सभी चिकित्सक एवं कर्मचारी मूल पदस्थापना स्थान में ड्यूटी करते हैं? नाम, स्थान सहित सूची उपलब्ध करायें। ओ.पी.डी. समय में कौन-कौन चिकित्सक ड्यूटी करते हैं? क्या निर्धारित पूरे समय पर अपने कक्ष में उपस्थित रहकर डॉक्टर ड्यूटी करते हैं? कितने कर्मचारी मूल पदस्थापना के बजाय अन्यत्र कार्यरत हैं? उनकी सूची देवें। शासन द्वारा समस्त संलग्नता पर प्रतिबंध होने के उपरांत उन्हें मूल पदस्थापना स्थान पर वापिस क्यों नहीं किया गया? रोगी कल्याण निधि एवं किचिन में आय-व्यय राशि के लेखा जोखा की प्रति उपलब्ध करायें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) जी हाँ जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। कण्डम की प्रक्रिया वर्तमान में प्रचलन में है। जिसके कारण विक्रय की राशि आकलन नहीं किया जा सकता है। विक्रय करने की निविदा सूचना एम.पी. ई-टेण्डर्स वेबसाइट पर प्रकाशित की गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' अनुसार। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''इ'' अनुसार। जी हाँ, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ई'' अनुसार। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जिला पन्ना द्वारा अपने आदेश क्रमांक 2007-8 पन्ना, दिनांक 05.03.2025 तथा आदेश क्रमांक 2026-27, दिनांक 05.03.2025 के द्वारा समस्त अन्यत्र स्वास्थ्य संस्थाओं में कार्यरत करने वाले चिकित्सकों/कर्मचारियों की पदस्थापना निरस्त की जा चुकी है। आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'फ'' अनुसार। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ह'' अनुसार।
आयुष्मान योजना का लाभ
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
158. ( क्र. 2885 ) श्री अनिल जैन : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला निवाड़ी में ऐसे कौन-कौन से अस्पताल हैं, जो मरीजों को आयुष्मान योजना का लाभ उपलब्ध कराते हैं? उक्त अस्पतालों को आयुष्मान योजना से कितनी राशि का भुगतान किया गया है? मरीजवार, अस्पतालवार जानकारी देवें। (ख) उक्त अस्पतालों में से ऐसे कौन से अस्पताल हैं, जो मरीजों से उपचार की राशि लेने के बावजूद भी उनके बिल आयुष्मान योजना के अंतर्गत लगाये हैं? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के संदर्भ में क्या आयुष्मान योजना अंतर्गत भर्ती मरीजों का इलाज हो जाने के बाद एवं मरीज के ठीक होने के बाद भी मरीजों को अस्पताल द्वारा आयुष्मान योजना से ज्यादा राशि लेने के लिए अतिरिक्त दिनों तक भर्ती रखा जाता है? यदि हाँ, तो ऐसे अस्पतालों की कब तक जांच कराई जावेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ख) आज दिनांक तक आयुष्मान योजना से सम्बद्ध दोनों चिकित्सालयों में ऐसे कोई भी मामले की शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
चिकित्सालय संचालन में अनियमितताओं पर रोक
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
159. ( क्र. 2900 ) डॉ. अभिलाष पाण्डेय : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2021 में जबलपुर स्थित शा. नेता जी सुभाष चंद्र बोस चिकित्सालय अंतर्गत सुपर स्पेशलिटी चिकित्सालय प्रबंधन पर एक्सपायर्ड केमिकल एवं डिस्टिल्ड वॉटर के उपयोग किये जाने के प्रकरण की जांच हेतु गठित तीन सदस्यीय समिति की जांच रिपोर्ट क्या थी? उक्त जांच के दौरान समिति द्वारा किन-किन को दोषी पाया गया? जांच रिपोर्ट उपलब्ध कराएं। (ख) मरीज के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ करने वाले उक्त दोषियों पर नियमानुसार क्या कार्यवाही की जानी थी? अब तक उक्त दोषियों पर नियमानुसार कार्यवाही क्यों नहीं की गई है? यदि कोई कार्यवाही की गई तो उसकी जानकारी दें। (ग) विभाग द्वारा उक्त प्रकार की अनियमितताओं की रोकथाम हेतु कोई योजना/नियमावली तैयार की है? (घ) विभाग द्वारा जिला जबलपुर स्थित समस्त शासकीय चिकित्सालयों का नियमानुसार संचालन किये जाने के संबंध में गत दो वर्षों में कब-कब जांच कराई गई? उक्त जांचों में क्या-क्या गड़बडि़यां पाई गई? चिकित्सालयवार जानकारी देवें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जांच रिपोर्ट की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-अ अनुसार है। (ख) पत्र क्रमांक 3635/डीएमई/कॉर्पो/2025, दिनांक 10/03/2025 के माध्यम से अधिष्ठाता, चिकित्सा महाविद्यालय जबलपुर को प्रकरण पर अभिमत प्राप्त करने हेतु पत्र प्रेषित किया गया है। अभिमत प्राप्त होने के पश्चात दोषियों पर नियमानुसार कार्यवाही की जा सकेगी। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-ब अनुसार है। (ग) जी हाँ। औषधि उपार्जन मार्गदर्शिका नियमावली के अनुसार कार्यवाही की जाती है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-स अनुसार है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-द अनुसार है।
आई.ई.सी. सलाहकारों की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
160. ( क्र. 2901 ) डॉ. अभिलाष पाण्डेय : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत मध्यप्रदेश में कितने आई.ई.सी. सलाहकार के पद स्वीकृत हैं? जिलेवार विवरण दें। इनमें से कितने जिलों में आई.ई.सी. सलाहकार कार्यरत हैं एवं कितने जिलों में कितने पद रिक्त हैं? (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित पद की शैक्षणिक/कार्यानुभव योग्यता क्या हैं और इनके कार्य दायित्व क्या हैं? विस्तृत विवरण दें एवं जानकारी दें कि वर्तमान कार्यरत आई.ई.सी. सलाहकारों में से कितने एवं कौन-कौन निर्धारित शैक्षणिक एवं कार्य अनुभव योग्यता का मापदंड पूर्ति नहीं करते है? सूची दें। (ग) आई.ई.सी. सलाहकार के रिक्त पदों की भर्ती क्यों नहीं की गई? इसका कारण स्पष्ट करें। पद पूर्ति न किये जाने पर उनके कार्य दायित्वों का निर्वहन किसके द्वारा किया जा रहा है? (घ) प्रदेश के अन्य जिलों में जिला आई.ई.सी. सलाहकार के रिक्त पदों की भर्ती कब तक की जायेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, म.प्र. अन्तर्गत राज्य स्तरीय कार्ययोजना 2024-25 अन्तर्गत राज्य स्तर पर आई.ई.सी. सलाहकार का 01 पद एवं जिला स्तर पर जिला आई.ई.सी. सलाहकार के 09 पद स्वीकृत है। जिसकी जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। जिलों में वर्तमान में 06 आई.ई.सी. सलाहकार कार्यरत हैं एवं 03 पद रिक्त हैं। (ख) जिला आई.ई.सी. सलाहकार के पद की शैक्षणिक/कार्यानुभव योग्यता की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, म.प्र. अन्तर्गत जिला आई.ई.सी. सलाहकार की नियुक्ति, निर्धारित मापदण्डों के अनुरूप की गयी है एवं निर्धारित शैक्षणिक एवं कार्य अनुभव की योग्यता का मापदण्ड पूर्ण न करने वाले सलाहकारों की जानकारी निरंक है। (ग) राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, म.प्र में रिक्त पदों की पूर्ति कार्ययोजना में स्वीकृति एवं आवश्यकता को दृष्टिगत रखते हुये की जाती है, जिलों में आई.ई.सी. संबंधी कार्यदायित्वों का निर्वहन करने वाले मानव संसाधन की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। (घ) प्रदेश में स्वीकृत किन्तु रिक्त 03 जिला आई.ई.सी. सलाहकार के पदों की पूर्ति हेतु निश्चित अवधि नहीं बतायी जा सकती।
सिंचाई हेतु नहरों का रख-रखाव
[जल संसाधन]
161. ( क्र. 2904 ) श्री नरेन्द्र सिंह कुशवाह : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भिण्ड विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत विभिन्न नहरों में रख-रखाव न होने व उचित पानी का दबाव कम होने के कारण अंतिम छोर (हेड टेल) तक पानी नहीं पहुंच रहा है? इस कारण किसानों को कई प्रकार की समस्याओं का सामना करना पड़ता है? (ख) भिण्ड विधानसभा क्षेत्र में कई नहरें मरम्मत के अभाव में जगह-जगह से टूट रही हैं? क्या कंक्रीट नहरें बनाये जाने का प्रस्ताव विभाग के समक्ष है? (ग) प्रश्नांश (क) और (ख) में वर्णित समस्याओं का समाधान कब तक होगा?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी नहीं, पलेवा एवं प्रथम पानी नहरों के अंतिम छोर के किसानों को जिला जल उपयोगिता समिति में लिए गये निर्णय अनुसार दिया जाना प्रतिवेदित है। (ख) नहरों में जहाँ क्रांक्रीट नहीं है, वहां लाइनिंग एवं स्ट्रक्चर कार्य संशोधित पार्वती-काली सिंध-चम्बल लिंक परियोजना अंतर्गत सम्मलित किये जाना प्रतिवेदित हैं। (ग) उत्तरांश 'क' एवं 'ख' के परिप्रेक्ष्य में निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
भिण्ड जिले में स्थाई जिला परिवहन अधिकारी की पदस्थी
[परिवहन]
162. ( क्र. 2905 ) श्री नरेन्द्र सिंह कुशवाह : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भिण्ड जिले में विगत कई माह से स्थाई जिला परिवहन अधिकारी न होने के कारण व वर्तमान में पदस्थ प्रभारी जिला परिवहन अधिकारी द्वारा जिले को उचित समय न दिये जाने के कारण आमजन को कई प्रकार की समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है? (ख) भिण्ड जिले को स्थाई परिवहन अधिकारी की नियुक्ति कब तक होगी? समय-सीमा बताएं।
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) एवं (ख) प्रदेश में परिवहन विभाग में 52 क्षेत्रीय/अति.क्षेत्रीय/जिला परिवहन कार्यालयों हेतु वर्तमान में कुल 43 अधिकारी उपलब्ध हैं। विभाग में उक्त स्तर के परिवहन अधिकारियों के पद रिक्त होने के कारण कार्यालय जिला परिवहन अधिकारी, भिण्ड सहित कई कार्यालयों के प्रभार अन्य जिलों के परिवहन अधिकारियों को दिये गये हैं। जिला परिवहन अधिकारी, भिण्ड द्वारा जिला परिवहन कार्यालय में आमजन द्वारा प्रस्तुत किये जाने वाले आवेदनों का नियमानुसार समय-सीमा में निराकरण किया जा रहा है। जिसके परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता। समय-सीमा बताना संभव नहीं है।
संजीवनी क्लीनिक में अनियमितता
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
163. ( क्र. 2906 ) श्री फुन्देलाल सिंह मार्को : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अनूपपुर जिले में जिला चिकित्सालय, सिविल अस्पताल, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, उप स्वास्थ्य केन्द्र, संजीवनी क्लीनिक संचालित हैं? इसमें कितने पद स्वीकृत हैं, कितने पदों पर पद स्थापना है, कितने पद रिक्त हैं? विकासखण्ड वार जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में दिनांक 1 जनवरी, 2022 से प्रश्नांकित अवधि तक उक्त चिकित्सालयों के लिये कौन-कौन सी दवाई, कब कब क्रय की गई? राशि सहित संपूर्ण विवरण देवें। (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में उक्त दवाई व अन्य वस्तु का क्रय कब-कब किया गया है? कब निविदा जारी की गई? किन-किन कंपनियों ने भाग लिया, क्रय समिति ने कब अनुमोदन किया? बिना टेण्डर की भी दवाई व अन्य वस्तुएं खरीदी गई हैं? यदि हाँ, तो विवरण देवें। (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) के संदर्भ में दवाई व अन्य आवश्यक वस्तुओं की खरीदी में आर्थिक अनियमितता की शिकायत प्राप्त हुई? किन-किन व्यक्तियों द्वारा शिकायत की गई? शिकायती आवेदन की प्रति उपलब्ध करावें एवं दवा खरीदी में की गई आर्थिक अनियमितता की जांच कौन-कौन से अधिकारी द्वारा कब-कब की गई? जांच प्रतिवेदन की प्रमाणित छायाप्रति उपलब्ध करावें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार क्रय निविदा राज्य स्तर से जारी की गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। जी नहीं शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी नहीं, विभाग को उक्त के संबंध में कोई शिकायत प्राप्त हुई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
फर्जी जाति प्रमाण-पत्र के आधार पर नियुक्ति
[जल संसाधन]
164. ( क्र. 2907 ) श्री फुन्देलाल सिंह मार्को : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जीवनलाल नंदा को दिनांक 23.7.2003 को जल संसाधन विभाग में न्यायालय नायब तहसीलदार, तहसील डिण्डोरी, जिला मंडला द्वारा जारी अ.ज.जा. (मांझी) के जाति प्रमाण-पत्र क्रमांक 14/बी-121/95, दिनांक 3.4.1995 के आधार पर अ.ज.जा. संवर्ग के आरक्षण के आधार पर उपयंत्री (नागरिक) के पद पर नियुक्त किया गया था, जो वर्तमान में जल संसाधन संभाग अनूपपुर में कार्यरत हैं तथा इनका नाम जल संसाधन विभाग द्वारा दिनांक 1.4.2021 की स्थिति में जारी उपयंत्री (नागरिक) की प्रावधानित पदक्रम सूची के सरल क्रमांक 2220 में अंकित है? (ख) क्या कार्यालय तहसीलदार, डिण्डोरी तहसील जिला डिण्डोरी के ज्ञाप क्रमांक/प्रवा. तह./2024/307, डिण्डोरी दिनांक 26.11.2024 के द्वारा सूचना का अधिकारी अधिनियम 2005 के अंतर्गत चाही गई जानकारी में श्री प्रकाश कोल, निवासी-धनपुरी, जिला शहडोल को लैखिक जानकारी दी गई है कि "जीवनलाल तनय परसराम, ग्राम घुसिया, तहसील डिण्डोरी जिला डिण्डोरी को नायब तहसीलदार तहसील डिण्डोरी के द्वारा जारी जाति प्रमाण-पत्र क्रमांक 14/ब-121/1995, दिनांक 03.04.1995 वर्ष 1994-95 की दायर पंजी में जारी होना नहीं पाया गया"। अतएव उक्त दस्तावेज प्रदाय करना संभव नहीं है। (ग) यदि प्रश्नांश (क) एवं (ख) के तथ्य सत्य है तो क्या जीवनलाल नंदा के द्वारा फर्जी जाति प्रमाण-पत्र के आधार पर अर्जित उप यंत्री (नागरिक) पद की शासकीय सेवा को तत्काल समाप्त कर उन्हें शासकीय सेवा काल में प्राप्त शासकीय स्वत्वों को राज-सात कर उनके विरूद्ध दस्तावेज में छेड़छाड़ धोखाधड़ी करने वाले दोषी कर्मचारी के विरुद्ध विभाग कब तक कार्यवाही कर संबंधित के विरूद्ध कब तक थाने में प्राथमिकी दर्ज करायेगा? यदि नहीं, तो क्यों?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी।
सिविल अस्पताल में उन्नयन
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
165. ( क्र. 2911 ) श्री बृज बिहारी पटैरिया : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सागर जिले की विधानसभा देवरी में कितने सामुदायिक स्वास्थ्य केंन्द्र कब से संचालित हैं? नाम बतायें? सामुदायिक स्वास्थ्य केंन्द्रों के उन्ननयन हेतु कब-कब मांग पत्र मान. मंत्री जी के माध्यम से प्रेषित किये गये? उन पर कब-कब क्या कार्यवाही हुई विवरण देवें। (ख) क्या वित्तीय वर्ष 2025-26 में देवरी को सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र का उन्नयन सिविल अस्पताल में किया जा रहा है? यदि हाँ, तो क्या वित्तीय वर्ष के अप्रैल माह में प्रारम्भ करा दिया जावेगा? (ग) चिकित्सकों (विशेषज्ञों) एवं अन्य स्टाफ की कमी को कब तक पूरा करा दिया जावेगा। कौन-कौन से पद रिक्त हैं? (घ) प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र केसली आदिवासी बाहुल्य दूरस्थ क्षेत्र के स्वास्थ्य केन्द्र को सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में उन्नयन किया जा रहा है? वर्तमान में भवन में प्रसूति कक्ष नहीं है, उसके निर्माण हेतु एवं सोनोग्राफी मशीन की सुविधा उपलब्धता हेतु क्या कार्यवाही की जा रही है? यदि हाँ, तो कब तक स्वीकृति प्रदान करा दी जावेगी? स्वास्थ्य केन्द्र सहजपुर को सोनोग्राफी मशीन कब तक प्रदान करायेंगे?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) विधानसभा क्षेत्र देवरी में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र देवरी वर्ष 1986 से संचालित है तथा सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र केसली वर्ष 2003 से संचालित है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) वर्तमान में वित्त विभाग म.प्र. शासन द्वारा लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग के लिए पूंजीगत कार्यों हेतु सूचकांक 3 निर्धारित किया गया है। निर्धारित सूचकांक अनुसार वर्तमान में विभाग अंतर्गत बैंक ऑफ सेंक्शन ऋणात्मक है, तदानुसार उन्नयन किया जाना संभव नहीं है। (ग) चिकित्सकों (विशेषज्ञों) एवं अन्य स्टाफ की पदपूर्ति निरंतर विभागीय प्रक्रिया है, निश्चित समयावधि बताना संभव नहीं है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। (घ) केसली में वर्तमान में सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र संचालित है तथा उक्त स्वास्थ्य केन्द्र में प्रसूति कक्ष उपलब्ध है। सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र केसली में सोनोग्राफी करने हेतु प्रशिक्षित पात्र चिकित्सक उपलब्ध न होने के कारण सोनोग्राफी मशीन प्रदान नहीं की गई है। प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र सहजपुर को विभाग द्वारा निर्धारित स्वास्थ्य संस्थाओं में उपकरणों की सूची अनुसार प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में सोनोग्राफी मशीन उपलब्ध कराने की पात्रता नहीं है।
भूमि का आधार से लिंक किया जाना
[राजस्व]
166. ( क्र. 2914 ) श्री राजेन्द्र भारती : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या किसानों की EKYC (आधार भूमि लिंक) की जा रही है? यदि हाँ, तो डेटा कहां से उपलब्ध होता है? उक्त डेटा समय-समय पर अपडेट किया जाता है, परन्तु कृषक के खसरा पर आधार नम्बर शो नहीं होता? उक्त EKYC में सम्पूर्ण कृषकों की निजी जानकारी व भूमि संबंधी जानकारी कहां तक सुरक्षित है? विस्तृत विवरण दें। (ख) इसी क्रम में किसानों की फॉर्मर रजिस्ट्री जो बनाई जा रही है, वह प्राइवेट स्थानीय युवाओं द्वारा बनाई जा रही है? जिस दौरान कृषक की भूमि संबंधी जानकारी यदि गलत दर्ज हो जाती है या कोई त्रुटि होती है, तो उक्त सुधार किसके द्वारा सही किया जाता है? (ग) वर्तमान में जो राजस्व विभाग के समस्त (ऐप) एम.पी. भू-अभिलेख साइड, सारा ऐप इत्यादि किस प्राईवेट संस्था द्वारा बनाये जा रहे हैं? उक्त समस्त ऐप आई.टी. सपोर्ट मध्यप्रदेश में किस कर्मचारी द्वारा अपडेट किये जा रहे हैं? कृपया जानकारी देते हुये बतायें कि श्री बृजेश नामदेव राजस्व निरीक्षक (वर्तमान में भोपाल आई.टी. सेंटर) में किस पद पर पदस्थ होकर समस्त मध्यप्रदेश कृषकों की निजी जानकारी को एकत्रित कर शासन के समस्त गोपनीय साइड एवं ऐप को संचालित किया जा रहा है? यदि हाँ, तो कारण सहित बतायें। (घ) क्या साइबर तहसील 2.0 पर जो रजिस्ट्री नामांतरण के आवेदन पंजीबद्ध होते हैं, उन आवेदनों के पास स्वीकृति होने की समय-सीमा क्या है? प्रकरण निराकरण होने पर किसान को एवं संबंधित पटवारी/कृषक को राजस्व न्यायालीन आदेश की प्रतिलिपि प्राप्त नहीं होती है? राजस्व विभाग के सारा पोर्टल पर विगत एक वर्ष में कृषकों के पी.एम. सम्मान निधि के आवेदन दर्ज कर एक्स.एम.एल. तहसीलदार आई.डी. पर प्रेषित की गई थी? उन कृषकों को आज दिनांक तक पी.एम. किसान सम्मान निधि का पैसा प्राप्त नहीं हुआ है क्यों? जिलावार जानकारी दें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। आधार (वित्तीय और अन्य सब्सिडी, लाभ और सेवाओं का लक्षित वितरण) अधिनियम, 2016 के प्रावधान अनुसार UIDAI की सेवाओं के माध्यम से डाटा उपलब्ध होता है। मध्यप्रदेश भू-राजस्व संहिता (भू-सर्वेक्षण तथा भू-अभिलेख) नियम, 2020 के तहत नियत प्रारूप में खसरा संधारित है। आधार अधिनियम 2016 एवं अन्य सुरक्षा संबंधी प्रावधान अनुसार डाटा सुरक्षित है। (ख) फॉर्मर रजिस्ट्री में कृषक की भूमि संबंधी जानकारी आदि में त्रुटि सुधार पटवारी एवं तहसीलदार द्वारा किया जा सकता है। (ग) सारा पोर्टल एवं सारा ऐप का प्रबंधन MPSeDC द्वारा किया जा रहा है एवं एम.पी. भूलेख पोर्टल का प्रबंधन कार्य विभाग द्वारा चयनित वेंडर द्वारा किया जा रहा है। आई.टी. का कार्य संबंधित आई.टी. सेल द्वारा किया जाता है। श्री बृजेश नामदेव, राजस्व निरीक्षक वर्तमान में मध्यप्रदेश भू-अभिलेख प्रबंधन समिति भोपाल में कार्यरत हैं। विभिन्न योजनाओं के संबंध में प्राप्त कृषकों की जानकारियां संबंधित डाटा सेन्टर्स पर संधारित की जाती हैं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) साइबर तहसील 2.0 में आविवादित नामांतरण प्रकरणों के निराकरण की अवधि 30 दिवस एवं विवादित नामांतरण प्रकरणों के निराकरण की अवधि पांच माह निर्धारित की गई है। आदेश की प्रति https://rcms.mp.gov.in वेबसाइट से प्राप्त ही जा सकती है तथा आवेदक कों एस.एम.एस. के माध्यम से प्राप्त होती है। पी.एम. किसान सम्मान निधि योजना हेतु निर्धारित मापदण्ड एवं अनिवार्य कार्यवाही पूर्ण करने वाले हितग्राहियों को योजना का लाभ प्राप्त हो रहा है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
दतिया जिले के प्रभारी जिला शिक्षा अधिकारी द्वारा भ्रष्टाचार
[स्कूल शिक्षा]
167. ( क्र. 2915 ) श्री राजेन्द्र भारती : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या स्कूल शिक्षा विभाग में कार्यरत दतिया के प्रभारी जिला शिक्षा अधिकारी को दतिया जिले के सेंवढ़ा विधानसभा क्षेत्र के भाजपा विधायक की शिकायत दिनांक 05/04/2024 के क्रम में लोकसभा निर्वाचन 2024 में दतिया जिले से हटाया गया था? यदि हाँ, तो शिकायत की प्रति सहित स्थानांतरण आदेश की प्रति प्रदान करें। (ख) क्या जिला शिक्षा अधिकारी के विरूद्ध आर्थिक अपराध ब्यूरो एवं म.प्र. लोकायुक्त में भ्रष्टाचार एवं अनियमितताओं की शिकायत की गई थी? यदि हाँ, तो उक्त शिकायत की जांच किसके द्वारा की गई? कृपया जांच रिपोर्ट सहित शिकायत की प्रतियां प्रदान करें। (ग) क्या जिला शिक्षा अधिकारी के कारनामों के संबंध में तत्कालीन दतिया कलेक्टर, श्री संजय कुमार द्वारा पत्र कमांक 7808, दिनांक 23/11/2022 को आयुक्त लोक शिक्षण म.प्र. को जांच कराने हेतु पत्र लिखा था? यदि हाँ, तो उक्त पत्र पर की गई कार्यवाही की प्रति प्रदान करें। क्या उपरोक्त गंभीर शिकायतों एवं अनियमितताओं के बाद दतिया जिले से हटाया गया था? यदि हाँ, तो विभाग की क्या मजबूरी है कि हटाने के बाद पुनः उसी पद पर दतिया जिले में पदस्थ किया गया है? कारण सहित बतायें। क्या जिला शिक्षा अधिकारी के भ्रष्टाचार एवं प्रताड़ना के कारण दतिया जिले में सेवानिवृत्त शिक्षक श्री कमल किशोर शर्मा द्वारा दिनांक 11/02/2025 को कलेक्टर दतिया की जनसुनवाई में आत्महत्या की अनुमति मांगने पर विवश होना पड़ा है? यदि हाँ, तो ऐसे भ्रष्ट अधिकारी के विरूद्ध विभाग पद से हटाकर दण्डात्मक कार्यवाही करेगा? यदि हाँ, तो कब तक? कारण सहित विवरण प्रदान करें। नहीं तो क्यों कारण बतायें। क्या उक्त डी.ई.ओ. की स्कूल शिक्षा विभाग अंतर्गत दतिया निवाड़ी एवं अशोकनगर जिले में पदस्थापना के दौरान विभाग एवं शासन तथा कलेक्टर्स को शिकायतें प्राप्त हुई थी? यदि हाँ, तो समस्त शिकायतों की प्रतियां प्रदान करते हुये, उन शिकायतों की जांच रिपोर्ट तथा की गई कार्यवाही का विवरण प्रदान करें। (घ) क्या दतिया जिला शिक्षा अधिकारी को विद्यालयों का निरीक्षण करने का नियम एवं आदेश है? यदि हाँ, तो उस नियम एवं आदेश की प्रतियां प्रदान करें? क्या जिला अधिकारी द्वारा उक्त आदेश के क्रम में विगत तीन वर्षों में विद्यालयों के निरीक्षण किये गये हैं? यदि हाँ, तो निरीक्षण किये गये विद्यालयों की सूची शिक्षकों को जारी किये गये नोटिसों की प्रतियां सहित नोटिस उपरांत शिक्षकों के विरूद्ध की गई कार्यवाही की प्रतियां प्रदान करें। क्या जिला शिक्षा अधिकारी दतिया द्वारा विगत 3 वर्षों में शिक्षकों के आसंजन किये गये हैं? यदि हाँ, तो आसंजित किये गये समस्त शिक्षकों की आसंजन अवधि सहित उपस्थिति पंजी की माहवार, विद्यालयवार सूची प्रदान करें। क्या आयुक्त लोक शिक्षण म.प्र. द्वारा शिक्षकों के आसंजन पर प्रतिबंध के बाद भी जिला शिक्षा अधिकारी दतिया द्वारा किये गये आसंजनों के संबंध में जिला शिक्षा अधिकारी बतिया के विरुद्ध कार्यवाही की जायेगी? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-01 एवं 02 अनुसार है। (ख) आर्थिक अपराध ब्यूरो भोपाल से शिकायतें प्राप्त हुई हैं, उक्त शिकायतों की जांच संभागीय संयुक्त संचालक लोक शिक्षण संभाग ग्वालियर से कराई जा रही है। जांच प्रचलन में है। शिकायतों की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-03 अनुसार है। (ग) जी हाँ। पत्र पर की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-04 अनुसार है। जी नहीं। उत्तर 'क' के पूर्वांश अनुसार कार्यवाही की गई थी। शासनादेश क्रमांक 1153, दिनांक 30.07.2024 द्वारा श्री यु.एन. मिश्रा को जिला शिक्षा अधिकारी दतिया पदस्थ किया गया है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। श्री कमल किशोर शर्मा सेवानिवृत्त शिक्षक द्वारा आत्महत्या की अनुमति संबंधी आवेदन दिनांक 11.02.2025 कलेक्टर जिला दतिया को प्रस्तुत किया गया था। कलेक्टर दतिया के आदेश क्रमांक 1222, दिनांक 11.02.2025 द्वारा अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) अनुभाग दतिया को जांच करने हेतु आदेशित किया गया है। जांच प्रतिवेदन प्राप्त होने के उपरांत गुण-दोष के आधार पर नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। जिला दतिया एवं जिला निवाड़ी में पदस्थापना के दौरान प्राप्त शिकायत एवं शिकायत पर की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-04 एवं 05 अनुसार है। (घ) जी हाँ। प्रतियां पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-06 अनुसार है। जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-07 अनुसार है। प्रश्नांकित अवधि में जिला शिक्षा अधिकारी दतिया द्वारा कोई आसंजन नहीं किये गये हैं। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
एम्बुलेंस सेवा में भ्रष्टाचार
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
168. ( क्र. 2918 ) श्री उमंग सिंघार : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत अनुबंधित जय अम्बे इमरजेंसी सर्विसेस द्वारा छत्तीसगढ़ नम्बरों की एम्बुलेंस मध्यप्रदेश में चलाई जा रही है? यदि हाँ, तो जानकारी दें? एम्बुलेंसों के अनुबंध दिनांक से आज दिनांक तक शासन/परिवहन विभाग को टेक्स की जानकारी दें। (ख) क्या जय अम्बे इमरजेंसी सर्विसेस को अनुबंध दिनांक से आज दिनांक तक राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन द्वारा सेवा शर्ते पूर्ण नहीं करने पर कितने नोटिसों तथा अनियमितताओं के संबंध में पत्र जारी किये गये? (ग) राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन में अनुबंधित जय अम्बे इमरजेंसी सर्विसेस को किये गये अनुबंध दिनांक से आज तक कितना भुगतान किया गया है? (घ) क्या अनुबंध की शर्तों का उल्लंघन हुआ है? यदि हाँ, तो इस संबंध में क्या कार्यवाही की गई? (ड.) शासन को हुई हानि के परिप्रेक्ष्य में प्रकरण की जांच की जायेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' एवं ''ब'' अनुसार। (ख) एजेंसी द्वारा सेवा शर्तों के अनुसार ही एम्बुलेंस वाहनों का संचालन किया जा रहा है। संस्था द्वारा लापरवाही/उदासीनता बरते जाने पर जारी किये गये पत्रों की छायाप्रति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''द'' अनुसार। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''इ'' अनुसार। (ड.) उत्तरांश ''घ'' अनुसार। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
रिक्त पदों की पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
169. ( क्र. 2925 ) श्री अजय विश्नोई : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जबलपुर जिले की प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र बोरिया विगत नवम्बर 2022 से कार्यरत है और इस प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में 12 पदों के विरूद्ध मात्र दो पद पर नियुक्ति की गई है? (ख) क्या जबलपुर जिले की प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र मोहला विगत जुलाई 2023 से कार्यरत है, परन्तु आज दिनांक तक एक भी पद पर किसी कर्मचारी की नियुक्ति नहीं की गई है? (ग) क्या जबलपुर जिले की प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र नुनसर एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र कटरा बेलखेड़ा के भवन बनकर तैयार हैं, परन्तु कर्मचारियों के अभाव में विभाग भवन अपने हैंडओवर नहीं ले रहा है? (घ) बोरिया, मोहला, नुनसर एवं कटरा-बेलखेड़ा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र के रिक्त पदों पर कब-तक चिकित्सक, नर्सिंग स्टॉफ एवं अन्य कर्मचारियों की नियुक्ति दे दी जायेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) नवीन स्वीकृत प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र बोरिया नवम्बर 2022 से संचालित है। पदस्थ अधिकारी/कर्मचारियों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) नवीन स्वीकृत प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र मोहला जुलाई 2023 से संचालित है। पदपूर्ति निरंतर प्रक्रिया है, वर्तमान में अन्य संस्था में पदस्थ चिकित्सा अधिकारी को मोहला में सेवायें प्रदान करने हेतु आदेशित किया गया है। (ग) जी नहीं, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र नुनसर एवं कटरा बैलखेड़ा के भवन को क्रमश: दिनांक 05 मार्च, 2025 एवं 12 फरवरी, 2025 को विभाग द्वारा हेंडओवर कर लिया गया है। (घ) प्रश्नांश में वर्णित संस्थाएं नवीन स्वीकृत है। पदपूर्ति एक निरंतर प्रक्रिया है, निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है।
निर्धारित गाइड-लाइन के विरूद्ध सम्पत्ति का विक्रय
[राजस्व]
170. ( क्र. 2926 ) श्री जयवर्द्धन सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दिनांक 20 मार्च, 2020 से प्रश्न दिनांक तक प्रदेश के किन-किन जिलों में सहारा समूह की जमीनों को नीलामी, व्यक्ति या संस्था के माध्यम से विक्रय किया गया है? सहारा समूह की विक्रय की गई संपत्तियों, जमीनों के क्रेतापक्ष संस्था का नाम, पता, मोबाइल नंबर सहित समस्त जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) उपरोक्तानुसार सहारा समूह की भोपाल, इंदौर, ग्वालियर, उज्जैन, सागर, दमोह, गुना, जबलपुर एवं कटनी जिलों में जमीनों का विक्रय किया गया है तो मान. उच्चतम न्यायालय द्वारा इस संबंध में पारित निर्णय अनुसार किन-किन जिलों की जमीनों के प्रतिफल में कितनी-कितनी राशि सेबी-सहारा रिफंड खाते में जमा की गई है और कितनी क्यों नहीं जमा की गई? (ग) प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित जिलों में किस-किस लोकेशन पर कितनी-कितनी जमीनें हैं? उक्त सभी लोकेशनों पर पिछले 10 वर्षों की कलेक्टर गाइड-लाइन की जानकारी उपलब्ध करायें। (घ) प्रश्नांश अवधि में सहारा समूह की जिन-जिन जमीनों को विक्रय किया गया है? क्या उन सभी जमीनों के विक्रय में मान. उच्चतम न्यायालय दिल्ली द्वारा जारी निर्देशों का पूर्ण पालन क्रेतापक्ष एवं विक्रेतापक्ष द्वारा किया गया है? यदि नहीं, किया गया है तो इसके लिये कौन-कौन जिम्मेदार हैं? संबंधितों पर कब और क्या कार्यवाही की जायेगी? क्या जमीनों के विक्रय पत्र में डायवर्टेड भूमि के स्थान पर कृषि भूमि का पूर्णतः या आंशिक उल्लेख कर स्टाम्प ड्यूटी की चोरी की गई है? यदि हाँ, तो इसके लिये कौन-कौन जिम्मेदार है? जिम्मेदारों पर कब और क्या कार्यवाही की जायेगी एवं उसकी वसूली संबधितों से कब की जायेगी? (ड.) कलेक्टर कार्यालय जबलपुर के राजस्व आदेश पत्रिका प्रकरण क्रमांक 141/अ-6-अ/2019-20 में आवेदकों ने आवेदन पत्र एवं साक्ष्य के आधार पर क्या प्रस्तुत कर, क्या मांग की? प्रकरण में प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाहीं की गई? एकल नस्ती एवं समस्त दस्तावेजों की प्रति सहित विस्तृत जानकारी दें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) भोपाल, ग्वालियर, गुना, जबलपुर एवं कटनी जिलों में सहारा समूह की जमीनों को नीलामी, व्यक्ति या संस्था के माध्यम से विक्रय की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) भोपाल, ग्वालियर, गुना, जबलपुर एवं कटनी जिलों में सहारा समूह की जमीनों को नीलामी, व्यक्ति या संस्था के माध्यम से विक्रय की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। सहारा समूह की इंदौर उज्जैन, सागर, दमोह जिलों का विक्रय नहीं हुआ है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ड.) न्यायालय कलेक्टर जबलपुर की दायरा पंजी एवं आर.सी.एम.एस. रिकॉर्ड के अनुसार प्रकरण क्रमांक 0141/31-6-31/2019-20 आवेदकगण (1) श्री सुधीर यादव (2) श्री विनोद यादव निवासी लार्डगंज जबलपुर में आवेदकगणों द्वारा स्व. श्री गुटई आत्मज लबरे अहीर द्वारा अपने जीवनकाल में निष्पादित किये गये, तकसीमनामा दिनांक 24/02/1939 के आधार पर आवेदकगणों के नाम अचल संपत्ति मौजा लक्ष्मीपुर न.ब. 643 स्थित खसरा नंबर 491 एवं 492 रकबा 0.522 हे. (1.29 एकड.) खसरा नंबर 491/2 रकबा 0.405 हे. (1.00 एकड़) इस प्रकार कुल रकबा 0.927 हे. (2.29 एकड.) भूमि वर्ष 1909-10 की मिसल बंदोबस्त में निजी भूमिस्वामी हक में दर्ज होने के आधार पर वर्तमान राजस्व अभिलेख में शासकीय दर्ज प्रविष्टि का त्रुटि सुधार कराया जाकर आवेदकगण के नाम शामिल खाते में दर्ज करने की मांग की गई है। म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 यथासंशोधित 2018 की धारा 115 (1) के तहत त्रुटिपूर्ण राजस्व अभिलेख के सुधार की कार्यवाही प्रारंभ करने की अनुमति तत्कालीन कलेक्टर जबलपुर के आदेश दिनांक 20/03/2020 द्वारा विभिन्न शर्तों के अधीन प्रदान की गई।
भ्रष्टाचार में लिप्त प्राचार्य पर कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
171. ( क्र. 2927 ) श्री जयवर्द्धन सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्त्ता के पत्र क्र. 744, दिनांक 23/10/2024, 782 दिनांक 11/02/2025, 784 एवं 785 दिनांक 20/02/2025 जो आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय, म.प्र. भोपाल को प्रेषित किया गया था, पत्र प्राप्ति दिनांक से प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही सा.प्र.वि. के आदेश क्रमांक एफ 19-76/2007/1/4 भोपाल दिनांक 22.3.2011 में उल्लेखित पांचों बिन्दुओं एवं परिशिष्टों (1, 2) का पालन सुनिश्चित कर किया गया है? कब-कब और क्या-क्या कार्यवाही सुनिश्चित की गई? संबंधित अधि./कर्म. का नाम, पदनाम, पत्रों/नियमों की प्रति सहित बतायें? (ख) क्या पत्र पर कृत कार्यवाही से प्रश्नकर्ता को संपूर्ण जानकारी उपलब्ध करा दी गई है? यदि नहीं, तो सा.प्र.वि. के आदेश के बिन्दु क्र. 5 एवं सा.प्र.वि. के आदेश क्र. एफ 19-76/2007/1/4 दिनांक 19/07/2019 के अन्तर्गत संबंधित अधिकारी/कर्मचारी की जबावदेही निर्धारित करते हुये उनके विरुद्ध आचरण या सेवा के नियमों के अधीन अवचार समझा जाकर अनुशासनात्मक कार्यवाही कर निलंबन किया जायेगा? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) पत्र क्र. 782 पर रायसेन जिला शिक्षाधिकारी ने किसके विरूद्ध किस प्रकरण में एफ.आई.आर. दर्ज कराकर क्या कार्यवाही की? जिला स्तर पर जनवरी 24 से प्रश्न तक कितने के विरूद्ध कब और क्या कार्यवाहीं की गई? यदि नहीं, की गई तो कारण सहित बतायें एवं इस संबंध में आयुक्त, लो.शि. संचा. की क्या जिम्मेदारी? (घ) क्या यू.डी.आई.एस.ई. द्वारा स्कूलों में शौचालय की स्थिति बताई गई? संपूर्ण जानकारी दें। इस संबंध में मान. मुख्यमंत्री, स्कूल शिक्षा मंत्री, कलेक्टर विदिशा को दिनांक 22/1/25 को कलेक्ट्रेट में ज्ञापन प्राप्त हुआ है? उस पर कब और क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) कार्यालयीन प्रक्रिया में की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-एक अनुसार है। पत्र क्रमांक-782, दिनांक 11.02.2025 के संबंध में कार्यवाही प्रचलित है। (ख) उत्तरांश ''क'' के अनुसार शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-दो एवं ''तीन'' अनुसार है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) जी हाँ। प्रश्नाधीन जिला-विदिशा में स्थित सभी शासकीय हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों में शौचालय उपलब्ध है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
मोर पहाड़ी महोत्सव मनाया जाना
[संस्कृति]
172. ( क्र. 2932 ) श्री हरिशंकर खटीक : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भाषा भारती कक्षा 3 समग्र शिक्षा म.प्र. राज्य शिक्षा केन्द्र भोपाल वर्तमान में एक पुस्तक है, जिसके विविध प्रश्नावली-2 कमांक-16 पर बुन्देल केसरी-वीर छत्रसील जीवनी पृष्ठ क्रमांक 110 पर उल्लेखित है? (ख) प्रश्नांश (क) के आधार पर बतायें कि क्या इसमें उल्लेख है कि महाराजा छत्रसाल का जन्म चार मई वर्ष सोलह सौ उन्चास (4 मई, सन् 1649) को टीकमगढ़ जिले के मोर पहाड़ी नामक स्थान पर हुआ था? क्या उनके पिता चम्पतराय बुन्देला नुना महेबा के जागीरदार थे? क्या यह जानकारी सही है या गलत है? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के आधार पर बतायें कि मोर पहाड़ी टीकमगढ़ जिले की कौन से विधानसभा क्षेत्र के कौन सी जनपद पंचायत के कौन सी वर्तमान तहसील के अंतर्गत है एवं यह भी बतायें कि नुना महेबा कहाँ पर स्थित है? (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) के आधार पर बतायें कि जब महाराजा छत्रसाल का जन्म मोर पहाड़ी ग्राम जिला टीकमगढ़ में हुआ था तो प्रश्न दिनांक तक उनके जन्मोत्सव का महोत्सव संस्कृति विभाग द्वारा क्यों नहीं मनाया जा रहा है? संस्कृति विभाग के वार्षिक कैलेण्डर में इसका उल्लेख क्यों नहीं किया जा रहा है? विभाग द्वारा मोर पहाड़ी महोत्सव कब मनाया गया था और अब क्यों नहीं? वर्ष 2020 से प्रश्न दिनांक तक प्रश्नकर्ता द्वारा कब-कब कौन से प्रश्न विधानसभा में किये गये है? क्या संस्कृति विभाग इस वर्ष के वार्षिक कैलेण्डर में इसे जोड़कर प्रतिवर्ष 3 से 5 मई तक तीन दिवसीय मोर पहाड़ी महोत्सव इसी वर्ष से मनायेगा?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) ग्राम मोर पहाड़ी विधानसभा क्षेत्र-जतारा की जनपद पंचायत पलेरा में वर्तमान तहसील लिधौरा के अंतर्गत है। ग्राम नुना महेबा भी विधानसभा क्षेत्र जतारा की जनपद पंचायत पलेरा में तहसील लिधौरा के अंतर्गत स्थित है। (घ) विभिन्न महापुरूषों के जन्मोत्सव/महोत्सव पर आयोजन संबंधी कोई स्थायी नियम/प्रावधान विभाग स्तर पर नहीं है। क्षेत्र की कला संस्कृति के अनुसार समय-समय पर विभिन्न वर्षों में तैयार कलापंचांग अनुसार विभिन्न प्रकार के सांस्कृतिक आयोजन विभाग द्वारा उपलब्ध बजट सीमा में आयोजित किये जाते हैं। विभाग द्वारा दिनांक 22 मई, 2023 को मोर पहाड़ी महोत्सव मनाया गया था। कलापंचांग में शामिल किया जाकर निरंतर आयोजन किये जाने का प्रावधान नहीं है। आगामी वर्षों में अन्य चयनित कार्यक्रमों/आयोजनों के दृष्टिगत उपलब्ध बजट सीमा में आयोजन किये जाने हेतु कलापंचांग तैयार किया जा सकेगा।
बाजार मूल्य पर समिति को भूमि प्रदाय
[राजस्व]
173. ( क्र. 2933 ) श्री हरिशंकर खटीक : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या श्री दिगम्बर जैन समाज समिति जतारा जिला टीकमगढ़ द्वारा वर्षों से कब्जे की भूमि जनहित के कार्य में जैसे नेत्र शिविर, योग शिला एवं महिला उत्थान के कार्य सम्पादित कराने कौन से खसरा नंबर के कितने रकबे की कहां से और कब से मांगी जा रही है? सम्पूर्ण फाइल की छायाप्रतियां प्रदान करें। (ख) प्रश्नांश (क) के आधार पर बतायें कि इस भूमि की बाउण्ड्रीवाल ही बनाई गई है तो वह कितनी राशि का किस के द्वारा राशि व्यय की गई है? प्रश्नकर्ता द्वारा कब कितनी राशि विधायक विकास निधि से अनुशंसा करके कौन-कौन से कार्य कराने हेतु स्वीकृत की गई है? प्रश्न दिनांक तक उपरोक्त राशि का क्या हुआ? सम्पूर्ण जानकारी प्रदान करें। (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के आधार पर बतायें कि जब समिति प्रश्न दिनांक तक बाजार भाव मूल्य पर लेना चाहती है तो विभाग को क्या परेशानी है? क्या विभाग ने जनवरी 2020 से प्रश्न दिनांक तक भूमि किसी भी आवंटित नहीं की है, अगर की है तो प्रदेश में किस-किस को? क्या उपरोक्त भूमि बाजार भाव मूल्य पर प्रदाय हेतु मुख्यमंत्री, मुख्य सचिव, प्रमुख सचिव राजस्व के पास समिति जतारा द्वारा कब से मांग की जा रही है? वर्षों से कब्जे की भूमि की मांग किये जाने के बावजूद जिला प्रशासन टीकमगढ़ द्वारा फाइल क्यों भोपाल नहीं भेजी जा रही है? निश्चित समय-सीमा सहित बतायें, कब तक भेजी जायेगी? (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) के आधार पर बताये कि नगर जतारा जिला टीकमगढ़ संभाग सागर से उपरोक्त भूमि शासन द्वारा श्री दिगम्बर जैन समाज समिति जतारा को वर्तमान बाजार भाव मूल्य की राशि जमा करवाने कम्पलीट फाइल भोपाल प्रश्न दिनांक तक क्यों नहीं भेजी जा रही है? अगर भेजी जावेगी तो कब तक एवं निश्चित समय-सीमा सहित बतायें कि कब तक वर्तमान बाजार भाव मूल्य की राशि समिति जतारा द्वारा जमा करवाकर उपरोक्त भूमि आवंटित कर दी जायेगी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) तहसील जतारा अंतर्गत नगर परिषद जतारा के भूमि खसरा नं. 1682, रकबा 0.1742 हेक्टेयर भूमि वर्ष 2018-19 से मांग की जा रही है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित भूमि पर कार्य हेतु विधायक विकास निधि से कोई भी राशि स्वीकृत नहीं की गयी है। (ग) एवं (घ) विभाग में नियमानुसार प्रस्ताव पूर्णता के साथ प्राप्त होने पर भूमि आवंटन के संबंध में निर्णय लिया जाता है। जानकारी उत्तरांश (क) अनुसार है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
विभाग से संबंधित जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
174. ( क्र. 2937 ) श्री उमाकांत शर्मा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भोपाल एवं इदौर संभाग में निजी चिकित्सालयों एवं मेडिकल स्टोर की अनुमति के क्या नियम-निर्देश, आदेश हैं? छायाप्रति उपलब्ध करावें। प्रदेश में किन-किन स्थानों पर अस्पताल संचालित हैं? पदस्थ स्टाफ के नाम, पदनाम, योग्यता, अनुमति दिनांक सहित जानकारी जिलेवार उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में उक्त चिकित्सालयों एवं मेडिकल स्टोर का निरीक्षण किन-किन अधिकारियों द्वारा कब-कब किया बतावें। निरीक्षणकर्ता का नाम, पदनाम, दिनांक, निरीक्षण प्रतिवेदन की छायाप्रति उपलब्ध करावें। निरीक्षण में क्या-क्या कमियाँ पायी गई? अस्पताल एवं मेडिकल स्टोर संचालक पर क्या-क्या कार्यवाही की गई? (ग) विकासखण्ड सिरोंज एवं लटेरी में कहां-कहां निजी चिकित्सालय, मेडिकल स्टोर/अवैध क्लीनिक संचालित हैं? संचालक का नाम, पता, योग्यता, अनुमति दिनांक, अनुमति देने वाले का अधिकारी का नाम सहित समस्त अनुमतियों की छायाप्रति उपलब्ध करावें। (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में दिनांक 01 अप्रैल, 2019 से प्रश्नांकित दिनांक तक आयुष्मान योजना से कौन-कौन से मरीजों का उपचार किया। कितनी-कितनी राशि का भुगतान किया गया बतावें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) भोपाल एवं इंदौर संभाग में निजी चिकित्सालयों अनुमति संबंधी म.प्र. उपचर्यागृह तथा रूजोपचार संबंधी स्थापनाएं (रजिस्ट्रीकरण तथा अनुज्ञापन) अधिनियम, 1973 तथा नियम, 1997 (यथासंशोधित) 2021 की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘’अ’’ अनुसार। निजी मेडिकल स्टोर की अनुमति संबंधी औषधि विक्रय अनुज्ञप्तियां औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, 1940 एवं नियमावली 1945 के नियम 64 के प्रावधान अनुसार प्रदत्त की जाती है जिसकी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘’ब’’ अनुसार। प्रदेश में संचालित निजी अस्पतालों में पदस्थ स्टाफ के नाम, पदनाम, योग्यता, अनुमति दिनांक सहित स्थानवार तथा जिलेवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘’स’’ अनुसार। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में उक्त चिकित्सालयों एवं मेडिकल स्टोर के निरीक्षण करने वाले अधिकारियों के नाम, पदनाम तथा दिनांकवार जानकारी, निरीक्षण प्रतिवेदन की छायाप्रति, पाई गई कमियों एवं की गई कार्यवाही की जानकारी एकत्रित की जा रही है। (ग) विकासखण्ड सिरोंज तथा लटेरी में संचालित निजी चिकित्सालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘’द’’ अनुसार तथा मेडिकल स्टोर की जानकारी एकत्रित की जा रही है। संचालित अवैध क्लीनिक की जानकारी निरंक है। अतः शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में 01 अप्रैल 2019 से आयुष्मान योजना अंतर्गत विकासखण्ड सिरोंज एवं लटेरी में 03 निजी चिकित्सालयों का योजनांतर्गत संबद्धीकरण किया गया है। वर्ष 2020 से विकासखण्ड सिरोंज एवं लटेरी में आयुष्मान भारत 'निरामयम' योजना अंतर्गत संबद्ध 03 निजी चिकित्सालयों में एम्पैनलमेंट अनुसार नेत्र रोग, प्रसूति एवं स्त्री रोग, जनरल मेडिसिन, जनरल सर्जरी तथा अस्थी रोग के मरीजों का उपचार किया गया जिसके लिए किए गए भुगतान की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ‘’फ’’ अनुसार।
भाग-3
अतारांकित
प्रश्नोत्तर
जिला
चिकित्सालय
में
धर्मशालाएं व
दुकानें
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
1. ( क्र. 95 ) डॉ. सीतासरन शर्मा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला चिकित्सालय, नर्मदापुरम के परिसर में कितनी धर्मशालाएं एवं कितनी दुकानें हैं? धर्मशालाओं का क्या उपयोग हो रहा है? (ख) परिसर में उक्त दुकानें, कितने किराये पर किन-किन नागरिकों को, कब, किस प्रक्रिया के तहत आवंटित की गयी? (ग) उक्त दुकानों के किराये से प्रतिवर्ष चिकित्सालय को कितनी आय हुई एवं इनका क्या उपयोग किया गया?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जिला चिकित्सालय नर्मदापुरम के परिसर में कुल 02 धर्मशालायें तथा कुल 28 दुकानें संचालित है। एक धर्मशाला में पोषण पुनर्वास केन्द्र संचालित है तथा दूसरी धर्मशाला में सामाजिक न्याय के दिव्यांगजनों को प्रदाय किये जाने वाले उपकरण रखे गये हैं। (ख) जिला चिकित्सालय परिसर में रेडक्रास की कुल 25 दुकानें तथा रोगी कल्याण समीति की कुल 03 दुकानें है। कुल 25 दुकानों का आवंटन कलेक्टर एवं अध्यक्ष जिला रेडक्रास सोसायटी द्वारा अक्टूबर 2009 तथा कुल 03 दुकानें वर्ष 1980 में तत्कालीन धर्मशाला समिति द्वारा जिला चिकित्सालय एवं नागरिकों को आवंटित की गई है। दुकानों के किराये की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) रेडक्रास समिति के अंतर्गत 25 दुकानें संचालित है। इन दुकानों के किराये से प्रतिवर्ष रू. 3,60,000/- प्राप्त होते है, जिसका उपयोग रेडक्रास समिति के निर्णय अनुसार नियमानुसार किया जाता है एवं रोगी कल्याण समिति से 03 दुकानें संचालित की जा रही हैं, जिनसे रू. 7560/- प्रति वर्ष आय प्राप्त हो रही है तथा प्राप्त राशि का उपयोग रोगी कल्याण समिति के दिशा-निर्देश अनुसार जनहित में किया जा रहा है।
नर्मदापुरम जिले में परिवहन विभाग की भूमि व दुकानें
[परिवहन]
2. ( क्र. 96 ) डॉ. सीतासरन शर्मा : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नर्मदापुरम जिले में परिवहन विभाग की भूमि पर निर्मित दुकानें किस-किस को कब-कब किस प्रक्रिया के अंतर्गत, कितनी राशि में, कितने क्षेत्रफल की, किन शर्तों पर कितने समय हेतु आवंटित की गयी? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में दुकान आवंटन की शिकायत की जांच परिवहन विभाग द्वारा की गयी थी। यदि हाँ, तो जाँच प्रतिवेदन से अवगत करावें।
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) नर्मदापुरम बस स्टैण्ड पर मध्यप्रदेश सड़क परिवहन निगम की स्ववित्तीय स्वामित्व की भूमि पर स्ववित्तीय योजना अंतर्गत निर्मित दुकानों की निविदा प्रक्रिया के तहत वर्षवार कण्डिका (5) में एवं कण्डिका (8) में अंकित मूल्य (प्रीमियम) पर कण्डिका (7) में अंकित दुकानों का क्षेत्रफल दर्शित है। कण्डिका (6) में लीज अवधि दर्शित है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) में दुकान आवंटन के संबंध में मध्यप्रदेश सड़क परिवहन निगम मुख्यालय में शिकायत प्राप्त होना नहीं पाया गया। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
सीएम राईज स्कूल भवन निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
3. ( क्र. 105 ) श्री हेमन्त विजय खण्डेलवाल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बैतूल जिले में कितने सीएम राईज स्कूल भवन निर्माणाधीन है? सभी निर्माणाधीन भवन निर्धारित समय-सीमा में पूर्ण होंगे? (ख) बैतूल जिले को दूसरे चरण में कितने सीएम राईज स्कूलों की स्वीकृति दी जावेगी? सूची उपलब्ध कराई जाये?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) बैतूल जिले में कुल 03 सीएम राइज स्कूलों के भवन निर्माणाधीन है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) सीएम राइज विद्यालयों की स्वीकृति बजट की उपलब्धता पर निर्भर है। अतएव निश्चित संख्या एवं सूची उपलब्ध कराया जाना संभव नहीं है।
नर्मदा परिक्रमा पथ निर्माण
[संस्कृति]
4. ( क्र. 183 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पूरे देश से बड़ी संख्या में श्रद्धालुगण माँ नर्मदा की पैदल परिक्रमा करते है। श्रद्धालुओं की यात्रा को सुगम व सरल बनाने हेतु सरकार द्वारा नर्मदा पथ बनाये जाने की बात कही जाती रही है। क्या वर्तमान में नर्मदा किनारे पैदल यात्रियों के लिए नर्मदा पथ बनाये जाने की कोई योजना बनाई गई अथवा प्रचलन में है क्या? (ख) यदि हाँ, तो योजना की वर्तमान स्थिति क्या है व नर्मदा पथ का कार्य कब तक पूर्ण कर लिया जावेगा? समय-सीमा बतायें। (ग) यदि नहीं, तो इसका क्या कारण है? स्पष्ट करें क्योकि माँ नर्मदा की पैदल परिक्रमा करने वाले लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) वर्तमान में कोई योजना प्रस्तावित नहीं है। (ख) प्रश्नांश 'क' के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) नर्मदा पथ बनाये जाने का कार्य विभाग द्वारा नहीं किया जाता है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
परिवहन विभाग की शिकायतों पर कार्यवाही
[परिवहन]
5. ( क्र. 283 ) श्री लखन घनघोरिया : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विगत तीन वर्षों में प्रश्न दिनांक तक मध्यप्रदेश लोकायुक्त कार्यालय को परिवहन बेरियर पर अवैध वसूली करके काली कमाई करने की कौन-कौन सी शिकायतें प्राप्त हुई हैं? सभी शिकायतों की प्रतिलिपि, शिकायतकर्ता के नाम और उनके प्राप्त होने की दिनांक सहित उपलब्ध कराए? (ख) ऐसी कौन-कौन सी शिकायतें हैं जिनमें शिकायतकर्ता के नाम पर उल्लेख नहीं है? (ग) उपरोक्त में किन-किन शिकायतों पर कार्यवाही की गई और किन शिकायतों को नस्तीबद्ध कर दिया गया? (घ) क्या सौरभ शर्मा के निवास पर लोकायुक्त के छापे के दौरान ही उसके निवास से सोना और नगदी से भरे हुए वाहन को बाहर निकाला गया और लोकायुक्त कार्यालय के अधिकारियों ने अनदेखी करके उसे बाहर जाने दिया? (ड.) यदि हाँ, तो इसके लिए कौन-कौन दोषी अधिकारी है?
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) लोकायुक्त संगठन की शिकायत एवं जांच शाखा में विगत तीन वर्षों में परिवहन बेरियर पर अवैध वसूली से संबंधित प्राप्त 08 शिकायतों की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के पत्रक ''अ'' अनुसार है। (ख) उत्तरांश 'क' अनुसार संगठन की शिकायत एवं जांच शाखा में शिकायत पंजी क्रमांक 3208/सी/24-25 में शिकायतकर्ता के नाम का उल्लेख नहीं है। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के पत्रक ''ब'' अनुसार है। (ग) संगठन की शिकायत एवं जांच शाखा की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के पत्रक ''अ '' एवं ''ब'' अनुसार है। समस्त शिकायतें परीक्षणोपरान्त नस्तीबद्ध की गई है। लोकायुक्त संगठन की विशेष पुलिस स्थापना में विगत 03 वर्षों में प्रश्न दिनांक परिवहन बैरियर पर अवैध वसूली करके काली कमाई के संबंध में जिन अधिकारियों/कर्मचारियों के विरूद्ध आपराधिक प्रकरण पंजीबद्ध होकर विवेचनाधीन है उनकी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के पत्रक 'स' अनुसार है। (घ) जी नहीं, विशेष पुलिस स्थापना (लोकायुक्त संगठन) म.प्र. भोपाल द्वारा दिनांक 19.12.24 एवं 20.12.24 को आरोपी श्री सौरभ शर्मा, सेवानिवृत्त आरक्षक, म.प्र. परिवहन विभाग भोपाल के निज निवास ई-7/78 एवं कार्यालयीन आवास ई-7/657, अरेरा कॉलोनी, भोपाल में विधिवत तलाशी की कार्यवाही संपन्न की गई, उक्त कार्यवाही के दौरान उपरोक्त दोनों ही स्थानों से किसी भी वाहन को बाहर नहीं निकाला गया। अतः लोकायुक्त कार्यालय के अधिकारियों की अनदेखी का प्रश्न ही नहीं उठता। (ड.) उत्तरांश (घ) के परिप्रेक्ष्य में शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
चिकित्सक विशेषज्ञ के रिक्त पदों की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
6. ( क्र. 284 ) श्री लखन घनघोरिया : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश के सरकारी अस्पतालों में अनेस्थिसिया विशेषज्ञ, मेडिसन विशेषज्ञ, स्त्रीरोग विशेषज्ञ, अस्थि रोग विशेषज्ञ, शिशु रोग विशेषज्ञ, पैथोलॉजिस्ट, रेडियोलॉजिस्ट, शल्य क्रिया विशेषज्ञ, क्षय रोग विशेषज्ञ, दंत रोग विशेषज्ञ, मानसिक रोग विशेषज्ञ और चर्मरोग विशेषज्ञ के अलग-अलग कितने-कितने पद स्वीकृत हैं? (ख) उपरोक्त में कितने-कितने पदों पर विशेषज्ञ, कार्यरत हैं और कितने-कितने पद रिक्त हैं? (ग) राज्य सरकार रिक्त पदों को भरने के लिए क्या कार्यवाही कर रही हैं और इन्हें कब तक भरा जायेगा?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) विशेषज्ञों के कुल स्वीकृत, कार्यरत एवं रिक्त पदों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ग) विशेषज्ञों के 1388 पदों तथा चिकित्सा अधिकारियों के 1832 रिक्त पदों की पूर्ति हेतु मांग-पत्र मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग को प्रेषित किया गया है। मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा चयन सूची उपलब्ध कराये जाने उपरांत पदस्थापना की कार्यवाही की जाना संभव है। पदपूर्ति निरंतर प्रक्रिया होने से समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
अमानक दवाइयों की रिपोर्ट
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
7. ( क्र. 285 ) श्री लखन घनघोरिया : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राज्य में नकली, सब-स्टैण्डर्ड व अमानक दवाइयों के कुल कितने नमूने जनवरी 2019 से प्रश्न दिनांक तक लिये गये व कितने नमूने जांच के लिए लैब में भेजे गये? उक्त नमूनों में कितनों की रिपोर्ट प्राप्त हुई व कितनों की किन कारणों से लंबित है? (ख) वर्तमान में नकली, अमानक व सब स्टैण्डर्ड दवाइयों की जांचों हेतु कितनी लेबोरेटरी कहाँ-कहाँ संचालित हैं? (ग) नकली व अमानक दवाइयों के प्रकरणों में सक्षम न्यायालय में कुल कितने चालान उक्त अवधि तक प्रस्तुत किये गये? उनमें कितनों का क्या निराकरण हुआ? (घ) क्या नकली और अमानक दवाएं खरीद कर आमलोगों के जीवन से खिलवाड़ करने वाले अधिकारियों और दवा सप्लायर पर सरकार ने कोई सख्त कार्यवाही की हैं? यदि हाँ, तो विवरण उपलब्ध कराए?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जनवरी 2019 से प्रश्न दिनांक तक दवाइयों के कुल 28325 नमूने लिए जाकर जांच हेतु राज्य एवं राज्य के बाहर स्थित औषधि परीक्षण प्रयोगशालाओं में भेजे गये हैं एवं कुल 22039 नमूनों की जांच रिपोर्ट प्राप्त है। राज्य स्थित औषधि परीक्षण प्रयोगशाला में क्षमता से अधिक कार्य होने के कारण 6279 नमूनों की जांच लंबित है एवं केन्द्रीय/रीजनल औषधि परीक्षण प्रयोगशाला में कुल 07 औषधियों के नमूनों की जांच रिपोर्ट लंबित है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार। (ग) प्रदेश में जनवरी 2019 से प्रश्न दिनांक तक की अवधि में नकली व अमानक दवाइयों के प्रकरणों में सक्षम न्यायालय में 12 चालान प्रस्तुत किये गये जो कि वर्तमान में माननीय न्यायालयों में प्रचलन में हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' अनुसार।
सरकारी स्कूलों में स्वीकृत पद संरचना
[स्कूल शिक्षा]
8. ( क्र. 286 ) श्री लखन घनघोरिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जबलपुर जिले में कुल सरकारी स्कूलों में स्वीकृत पद संरचना के तहत पदस्थ शिक्षकों का कितना स्टाफ पदस्थ हैं एवं कितने पद रिक्त हैं? (ख) उपरोक्त में से कितने स्कूल ऐसे हैं जिनमें केवल एक शिक्षक हैं? (ग) कितने स्कूलों में शौचालय प्रचलन में नहीं है और कितने स्कूल शौचालय विहीन हैं? (घ) कितने स्कूलों में बालिकाओं के लिए अलग से शौचालय नहीं बनाये गये हैं? (ड.) कितने स्कूलों में भवन नहीं हैं तथा कितने स्कूलों के भवन जर्जर हालत में है। कितने स्कूलों में खेल मैदान नहीं हैं? कितने स्कूलों में छात्रों के लिए टेबिल कुर्सी न होने के कारण वे टाट पट्टी पर बैठकर अध्ययन कर रहे हैं? कितने स्कूलों में छात्रों के लिए पेय जल का इंतजाम नहीं हैं एवं कितने स्कूल विद्युतविहीन हैं।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशष्ट-01 अनुसार। रिक्त पदों पर अतिथि शिक्षकों को रखे जाने का प्रावधान हैं। (ख) जबलपुर जिले में 30 शालाओं में एक शिक्षक कार्यरत है। (ग) समस्त 1576 प्राथमिक/माध्यमिक शाला में शौचालय है। 163 शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं में शौचालय मरम्मत योग्य है परन्तु वे उपयोग में लाये जा रहे है। (घ) समस्त शालाओं में बालिका शौचालय है। (ड.) जानकारी संलग्न परिशिष्ट-02 अनुसार।
नहरों की जानकारी
[जल संसाधन]
9. ( क्र. 400 ) कुँवर अभिजीत शाह : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) हरदा जिले के लिए 'तवा बांध के पानी हेतु कितने किलो मीटर किस-किस श्रेणी की नहर वर्तमान में कार्यरत है इस नहर से वर्ष 2023 वर्ष 2024 एवं प्रश्नांकित दिनांक तक कितना-कितना पानी छोड़े जाने का ब्यौरा लाग बुक में किस-किस दिनांक को दर्ज किया गया। वर्ष 2023 से प्रश्नांकित दिनांक तक नहर में पानी छोड़े जाने में आई कमी का क्या कारण रहा है। (ख) प्रचलित नहरों की मरम्मत एवं गेटों की मरम्मत हेतु विभाग ने गत तीन वर्षों में कितनी राशि की मांग किस-किस से की गई है। इस अवधि में कितनी राशि नहरों की मरम्मत एवं गेटों की मरम्मत पर खर्च की गई है। (ग) टिमरनी विधानसभा क्षेत्र में कितने गार्ड कितने, गेट कीपरों एवं कितने टाइम कीपरों के पद स्वीकृत है, कितने कार्यरत है, कितने पद रिक्त है रिक्त पदों पर नियुक्ति के संबंध में विभाग क्या कार्यवाही कर रहा है?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) हरदा जिले के लिए तवा बांध के पानी हेतु वर्तमान में कार्यरत नहरों का ब्यौरा संलग्न परिशिष्ट के ''प्रपत्र-अ'' अनुसार है। इन नहरों से वर्ष 2023 एवं 2024 से प्रश्नांकित दिनांक तक पानी छोड़े जाने का ब्यौरा लॉग बुक की छायाप्रति संलग्न ''परिशिष्ट-1'' अनुसार है। तवा बांध से प्रतिवर्ष वर्षाकाल उपरांत संग्रहित जल की मात्रा के अनुरूप प्रत्येक वर्ष रूपांकित क्षेत्र में जल उपलब्ध कराया जाना प्रतिवेदित है। (ख) प्रचलित गेटों की मरम्मत हेतु विगत 03 वर्षों में रू.44.43 लाख की मांग की जाना एवं गेटों की मरम्मत कार्य हेतु रू.44.43 लाख का व्यय किया जाना प्रतिवेदित है। नहरों के मरम्मत कार्य हेतु वर्षवार प्राप्त आवंटन एवं व्यय की गई राशि का विवरण संलग्न परिशिष्ट के ''प्रपत्र-ब'' अनुसार है। प्राप्त आवंटन रख-रखाव मद के अंतर्गत किया जाना प्रतिवेदित है। (ग) टिमरनी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत गार्ड, गेट कीपर, टाईमकीपर के कोई भी पद स्वीकृत नहीं है अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
पुनर्वास एवं पुनर्व्यवस्थापन का अधिनिर्णय
[राजस्व]
10. ( क्र. 401 ) कुँवर अभिजीत शाह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या बैतूल जिले में बरेठा एवं धार के जिन आदिवासियों के मकान एवं दुकान के अर्जन का आदेश राष्ट्रीय राजमार्ग के लिए किया है उनके पुनर्वास एवं पुनर्व्यवस्थापन का अधिनिर्णय भारत सरकार ग्रामीण विकास मंत्रालय नई दिल्ली की राजपत्र में दिनांक 28 अगस्त 2015 को प्रकाशित अधिसूचना के बाद भी पारित नहीं किया गया। (ख) अधिसूचना दिनांक 28 अगस्त 2015 में क्या-क्या प्रावधान दिया हैं, भूमि अर्जन एवं पुनर्वासन पुनर्व्यवस्थापन में उचित प्रतिकर एवं पारदर्शिता का अधिकार अधिनियम 2013 की धारा 31 अनुसूची दो, तीन एवं चार में क्या प्रावधान दिया है। (ग) बरेठा एवं धार के किस किसान ने आयुक्त नर्मदापुरम के समक्ष किस दिनांक को अपील प्रस्तुत की उस पर कलेक्टर बैतूल ने किस दिनांक को क्या आदेश दिया कलेक्टर के आदेशानुसार धारा 31 के अनुसार किस दिनांक को अधिनिर्णय दिया? यदि नहीं, दिया तो कारण बतावें। (घ) कब तक पुनर्वास एवं पुनर्व्यवस्थापन का अधिनिर्णय दिया जावेगा समय-सीमा सहित बतावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। बैतूल जिले में बरेठा एवं धार के जिन आदिवासियों के मकान एवं दुकान के अर्जन का आदेश राष्ट्रीय राजमार्ग के लिए किया है, उनके पुनर्वास एवं पुनर्व्यवस्थापन का अधिनिर्णय भारत सरकार ग्रामीण विकास मंत्रालय नई दिल्ली के राजपत्र में दिनांक 28 अगस्त 2015 को प्रकाशित किया गया है। न्यायालय कलेक्टर एवं मध्यस्थता प्राधिकारी (भू-अर्जन) जिला बैतूल के द्वारा भू-अर्जन अधिकारी शाहपुर को पुनर्वास एवं पुनर्व्यवस्थापन के लिए प्रक्रिया/प्रावधानों के अनुसार गुण-दोष के आधार पर विचार करते हुए निराकरण करने हेतु आदेश किया गया है, जिसमे पुनर्वास एवं पुनर्व्यवस्थापन के अधिनिर्णय की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट –'अ' अनुसार। (ग) बरेठा एवं धार के किसानों के द्वारा आयुक्त नर्मदापुरम संभाग नर्मदापुरम के समक्ष अपील प्रस्तुत की गई थी, जो आयुक्त न्यायालय से अंतरण उपरांत कलेक्टर न्यायालय बैतूल में प्राप्त होकर निराकृत की गई। किन किसानों ने अपील की, किस दिनांक को अपील की तथा कलेक्टर बैतूल ने किस दिनांक को क्या आदेश पारित किया, इस संबंधी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट –'ब' अनुसार तथा कलेक्टर के आदेशानुसार धारा 31 के अनुसार अधिनिर्णय की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। (घ) पुनर्वास एवं पुनर्व्यवस्थापन के लिये अधिनिर्णय के संबंध में गुण-दोष एवं प्रावधानों की परिधि में निराकरण की कार्यवाही प्रचलन में हैं। निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं हैं।
वनखण्ड से भूमि का पृथकरण
[राजस्व]
11. ( क्र. 404 ) कुँवर अभिजीत शाह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विभागीय औद्योगिक प्रयोजन के लिये आवश्यक भूमि के संबंध में अनुविभागीय अधिकारी देपालपुर इंदौर ने अपने प्रकरण क्रमांक 449/बी5121 वर्ष 2021-22 आदेश दिनांक 11/03/2022 से किस ग्राम के किस खसरा नंबर का कितना रकबा किस-किस वनखण्ड से पृथक किया। (ख) वनखण्ड से पृथक की गई भूमि किस ग्राम की मिसल बंदोबस्त, निस्तार पत्रक, अधिकार अभिलेख एवं खसरा पंजी में किस-किस मद एवं किस-किस प्रयोजन के लिए दर्ज भूमि हैं, खसरा नंबर एवं रकबा सहित बतावें। (ग) विभाग के आदेश दिनांक 11/03/2022 से पृथक की गई किस ग्राम की कितनी भूमि को वन भूमि मानकर वन संरक्षण कानून 1980 के तहत अनुमति का प्रकरण प्रस्तुत किया है प्रकरण की प्रति सहित बतावे। (घ) वन व्यवस्थापन अधिकारी द्वारा पृथक की गई भूमि को वनभूमि मानकर कार्यवाही करने का क्या कारण हैं।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-अ अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-ब अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट –'स'अनुसार। (घ) अनुविभागीय अधिकारी/वन व्यवस्थापन अधिकारी अनुभाग देपालपुर जिला इन्दौर न्यायालय के प्रकरण क्रमांक 449/बी-121/2021-22 पारित आदेश दिनांक 11/03/2022 में ब्यौरा जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट –'स' अनुसार।
पी.एम. श्री विद्यालयों में प्राप्त आवंटन एवं कराये गये कार्यों का ब्यौरा
[स्कूल शिक्षा]
12. ( क्र. 437 ) श्री भूपेन्द्र सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सागर जिले में स्वीकृत पी.एम. श्री विद्यालयों में विभाग द्वारा अभी तक किन-किन कार्यों एवं सुविधाओं हेतु कितनी-कितनी राशि का आवंटन विद्यालय अनुसार दिया गया? खुरई विधानसभा क्षेत्र के पी.एम. श्री विद्यालयों में विभाग द्वारा प्राप्त राशि का उपयोग किन-किन कार्यों में किसकी अनुमति से किया गया? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार पी.एम.श्री विद्यालयों में कराये जा रहे कार्यों एवं सुविधाओं के सफल संचालन हेतु क्या निगरानी समिति का प्रावधान है? यदि नहीं, तो विभाग द्वारा इसके लिए क्या प्रयास किये जा रहे हैं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' एवं ''ब'' अनुसार। खुरई विधानसभा क्षेत्र के पी.एम.श्री विद्यालयों में वरिष्ठ कार्यालय से प्राप्त राशि का उपयोग विभिन्न मदों में एसएमडीसी/एसएमसी समिति की अनुमति से किया जा रहा है। (ख) जी हाँ। जिला कलेक्टर की अध्यक्षता में निगरानी समिति गठित है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विभाग द्वारा की गई कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
13. ( क्र. 649 ) श्रीमती अनुभा मुंजारे : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) म.प्र. शासन सामान्य प्रशासन विभाग (आरक्षण प्रकोष्ठ) भोपाल के पत्र दिनांक 22/04/1993 के द्वारा प्रदेश में सहायक शिक्षकों एवं शिक्षकों के रिक्त पदों पर की गई, नियुक्ति आदेशों में डॉ. अर्चना भार्गव उप संचालक शिक्षा सागर म.प्र. द्वारा जारी आदेश क्रमांक/स्था03/परीवीक्षा/96/452-453 सागर, दिनांक 28/12/96 के द्वारा समान रूप से सागर जिले में नियुक्त कितने सहायक शिक्षकों के नियुक्ति आदेश संशोधित किये गये थे तथा संशोधित नियुक्ति आदेशों से कुल प्रभावित सहायक शिक्षकों की नामवार सूची, संशोधन आदेशों की छायाप्रति सहित तथा समान रूप से की गई कार्यवाही के द्वारा अधिक वसूली कार्यवाही से शासकीय मद में वसूली गई कुल राशि के देयकों की नामवार सूची सहित छायाप्रति उपलब्ध करावें। (ख) आदेश क्रमांक/स्था03/परीवीक्षा/96/452-453 सागर, दिनांक 28/12/96 जैसी कार्यवाही समान रूप से प्रदेश के कितने जिलों में की गई थी? संशोधन आदेश की छायाप्रति सहित उससे प्रभावित सहायक शिक्षकों की नामवार सूची प्रदाय की जावे। (ग) सा.प्र. विभाग (आरक्षण प्रकोष्ठ) भोपाल के पत्र दिनांक 22/04/1993 संदर्भ में नियुक्त सहायक शिक्षकों के नियुक्ति आदेश की सेवा-शर्तों को तीन वर्ष पश्चात दिनांक 28/12/96 को संशोधन करने का अधिकार उप संचालक शिक्षा, सागर को शासन के किस नियम/आदेश के द्वारा प्राप्त था? शासन के नियम/आदेश की छायाप्रति सहित सूचित की जावे।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। म.प्र. राजपत्र (असाधारण) भोपाल दिनांक 16 जून 1993 के अनुक्रम में संशोधित नियुक्ति आदेशों से कुल प्रभावित सहायक शिक्षकों की संख्या 06 है। कार्यरत शिक्षकों के सेवा अभिलेखों एवं उपलब्ध जानकारी अनुसार नियुक्त सहायक शिक्षकों को हुये अधिक भुगतान की राशि का समायोजन किया गया। अतः वसूली का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश (ख) के संबंध में म.प्र. राजपत्र (असाधारण) भोपाल दिनांक 16 जून 1993 के अनुक्रम में संशोधन किया गया है। उक्त संशोधन की कार्यवाही उप संचालक, (शिक्षा) के अधिकार क्षे़त्रान्तर्गत की गई है।
एकीकृत शाला गठन के दिशा-निर्देश
[स्कूल शिक्षा]
14. ( क्र. 650 ) श्रीमती अनुभा मुंजारे : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कार्यालय जिला शिक्षा अधिकारी को प्राथमिक एवं माध्यमिक शाला के एकीकृत किए जाने के संबंध में शासन स्तर से कौन-कौन से दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं? उन समस्त दिशा-निर्देशों की प्रति देवें l (ख) क्या प्राथमिक एवं माध्यमिक शाला का एकीकरण हो जाने के पश्चात प्राथमिक एवं माध्यमिक शाला के पृथक-पृथक भवन का भी एकीकरण हो जाता है एवं पूर्व से निर्मित प्राथमिक स्कूल भवन का वैधानिक अस्तित्व समाप्त हो जाता है? (ग) क्या जिला शिक्षा केंद्र बालाघाट की नस्ती क्रमांक 171 के पृष्ठ क्रमांक 04 पर डीपीसी के मत के अनुसार एकीकृत माध्यमिक शाला के अंतर्गत ही प्राथमिक शाला भवन आता है? क्या प्रश्नांश (क)एवं (ख) के उत्तर अनुसार यह सही है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ। शालाओं के एकीकरण के पश्चात समस्त संसाधनों का उपयोग एक शाला के रूप में किया जाता है। (ग) जी हाँ।
ग्रेसिम उद्योग की भूमियों का सर्वे नम्बर एवं स्वामित्व
[राजस्व]
15. ( क्र. 667 ) श्री चन्दरसिंह सिसौदिया : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नागदा स्थित ग्रेसिम स्टेपल फाइबर डिव्हीजन एवं इंजीनियरिंग डिव्हीजन के अधिपत्य एवं स्वामित्व की कुल कितनी हेक्टेयर भूमि दर्ज हैं? सर्वे नंबर सहित विवरण दे। (ख) मध्य भारत रियासत के समय तकायमी कारखाना कितनी-कितनी भूमि, किस-किस सर्वे नम्बर की लीज पर दी गई थी? (ग) उपरोक्त (ख) अंतर्गत आवंटित भूमि का भूमि स्वामी ग्रेसिम को किस आदेश, आधार पर बनाया गया, जबकि लीज भूमि शासन की हैं?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) नागदा स्थित ग्रेसिम स्टेपल फाईबर डिव्हिजन एवं इंजीनियरिंग के अधिपत्य एवं स्वामित्व की भूमि राजस्व अभिलेख में नागदा तहसील में दर्ज नहीं है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में पद्मावति राजे कॉटन मिल्स के द्वारा कम्पनी सेल डीड के माध्यम से तकायमी कारखाना हेतु आवंटित भूमि ग्रेसिम को हस्तांतरित कर दी गई थी।
मुआवजा राशि की जानकारी
[राजस्व]
16. ( क्र. 767 ) श्री विपीन जैन : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2019-2020 अंतर्गत मंदसौर विधान सभा में मुआवजा कितने लोगों को प्रदान किया गया कृषकों की संख्या ग्रामवार मय स्वीकृत राशि का विवरण देवें। (ख) प्रश्नांश (क) के अंतर्गत वर्ष 2019-2020 फसल मुआवजा की आरबीसी के तहत स्वीकृत समस्त राशि क्या किसानों को प्रदाय की जा चुकी है या नहीं, यदि नहीं, तो क्यों? (ग) प्रश्नांश (ख) के अंतर्गत वह राशि कितनी है जो कि स्वीकृत है किन्तु प्रदान की जाना है क्या स्वीकृत राशि को रोकने संबंधी कोई प्रावधान है यदि है तो बताने का कष्ट करें और यदि नहीं, तो सम्पूर्ण स्वीकृत राशि का भुगतान आज दिनांक तक क्यों नहीं किया गया? (घ) स्वीकृत राशि का भुगतान इसलिये नहीं किया गया क्योंकि बजट आवंटन नहीं है तो क्या वर्ष 2019-2025 चल रहा है बजट की व्यवस्था अभी तक नहीं हो पाई, तो भविष्य में होने की संभावना है अथवा नहीं।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) वर्ष 2019-20 अंतर्गत मंदसौर विधान सभा में कुल 51179 प्रभावित कृषकों को रूपये 80,08,46,518/- की राहत राशि स्वीकृत की गई थी। ग्रामवार कृषकों की संख्या की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट -अनुसार है। (ख) वर्ष 2019-20 में मंदसौर विधानसभा क्षेत्र में राजस्व पुस्तक परिपत्र 6-4 के तहत् समस्त पात्र प्रभावित कृषकों को शासन के निर्णयानुसार राहत राशि प्रथम किश्त की राशि रूपये 52,60,90,784/- का वितरण किया जा चुका है। (ग) स्वीकृत राशि में से रूपये 27,47,55,734/- की राशि वितरण से शेष है। वित्तीय संसाधनों की उपलब्धता की सीमा में शासन के निर्णय अनुसार ही प्रभावित कृषकों को राहत राशि का वितरण किया गया है। अत: शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता। (घ) वित्तीय संसाधनों की उपलब्धता के आधार पर शेष राहत राशि के भुगतान के संबंध में कार्यवाही की जावेगी। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
स्कूलों में बाउण्ड्रीवाल निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
17. ( क्र. 840 ) श्री महेन्द्र नागेश : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि क्या विधानसभा गोटेगाँव के अंतर्गत प्राथमिक, माध्यमिक एवं हाईस्कूलों में बाउण्ड्रीवाल नहीं हैं? यदि हाँ, तो बाउण्ड्रीवाल का निर्माण कब तक होगा? यदि नहीं, तो क्यों नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। बाउण्ड्रीवाल निर्माण कार्य बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। शेषांश प्रश्न उद्भूत नहीं होता।
जर्जर स्कूलों के भवन का मरम्मत कार्य
[स्कूल शिक्षा]
18. ( क्र. 841 ) श्री महेन्द्र नागेश : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि क्या यह सही है कि गोटेगांव विधानसभा के अंतर्गत प्राथमिक, माध्यमिक एवं हाईस्कूल के भवन जर्जर स्थिति में है। यदि हाँ, तो जर्जर स्कूलों के भवन में मरम्मत कार्य कब तक होगा? यदि नहीं, तो क्यों नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : जी हाँ। वर्तमान वित्तीय वर्ष में शासकीय हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों की मरम्मत हेतु जिले को राशि रूपये रू50.00 लाख आवंटित किये गये है। शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं में 39 मरम्मत कार्य स्वीकृत किये गये है। शेष शालाओं में मरम्मत कार्य बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। उत्तरांश के प्रकाश में शेषांश प्रश्न उद्भूत नहीं होता।
जबलपुर जिले के अल्पसंख्यक स्कूल
[स्कूल शिक्षा]
19. ( क्र. 854 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या अल्पसंख्यक स्कूलों को शिक्षा के अधिकार अधिनियम 2009 के अंतर्गत छूट प्रदान की गई है? (ख) वर्ष 2024-25 के शैक्षणिक सत्र में अल्पसंख्यक स्कूलों में 60 प्रतिशत से अधिक बहुसंख्यक वर्ग के छात्र अध्ययनरत हैं? (ग) यदि हाँ, तो बहुसंख्यक कमजोर वर्ग के प्रवेशित छात्रों को आरटीई का लाभ नहीं मिल रहा है? (घ) प्रश्नांश (ख) का उत्तर यदि नहीं, है तो स्कूलवार दोनों वर्ग के छात्रों की दर्ज संख्या बतावें एवं किस आधार पर अल्पसंख्यक प्रमाण पत्र जारी किये गये हैं? मापदण्ड बताये?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) उत्तरांश 'क' अनुसार। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार।
उच्च पद का प्रभार
[स्कूल शिक्षा]
20. ( क्र. 877 ) श्री योगेन्द्र सिंह (बाबा) : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासकीय कन्या उ.मा.वि. सारंगपुर जिला राजगढ़ के अध्यापक के विरूद्ध माननीय उच्च न्यायालय के प्रकरण क्रमांक डब्ल्यू.ए. 409/2024 दिनांक 04.03.2024 को खारिज होने के पश्चात माननीय उच्च न्यायालय इन्दौर द्वारा पारित आदेश दिनांक 11.05.2023 का पालन सुनिश्चित करते हुये अभी तक स्कूल शिक्षा विभाग में संविलियन दिनांक 01.07.2018 से नहीं किया गया है स्पष्ट करें? (ख) माननीय उच्च न्यायालय इन्दौर द्वारा पारित आदेश दिनांक 11.12.2018 एवं 11.05.2023 तथा पारित आदेश दिनांक 04.03.2004 में स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा शिक्षा विशारद 2004 के संबंध में लगाई गई सभी आपत्तियां निरस्त करने के पश्चात जिला पात्रता समिति राजगढ़ द्वारा दिनांक 01.07.2018 से संविलियन नहीं करने पर कब तक संविलियन किया जायेगा स्पष्ट करें। (ग) शिक्षा विशारद सन् 2024 की मान्यता होने पर ही मान्य की गई थी किसी भी आदेश एवं जांच में शिक्षा विशारद 2004 का कहीं भी कोई उल्लेख नहीं है शिक्षा विशारद की मान्यता समाप्त होने पर हिन्दी साहित्य सम्मलेन इलाहाबाद द्वारा 2005 से परीक्षा का आयोजन ही नहीं किया गया है इसलिये किसी भी आदेश एवं निर्देशों में शिक्षा विशारद 2004 का उल्लेख नहीं होने पर दिनांक 01.07.2018 से स्कूल शिक्षा विभाग में संविलियन किया जायेगा तथा अवमानना प्रकरण सीओएनसी 5.87/2023 पारित आदेशों का पालन किया जायेगा स्पष्ट करें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नांकित न्यायालयीन प्रकरणों में पारित आदेश के क्रम में संबंधित अध्यापक की निलंबन अवधि को कर्तव्य अवधि मान्य कर समस्त स्वत्वों का भुगतान किया जा चुका है। मान्यता प्राप्त संस्थान से निर्धारित व्यावसायिक योग्यता प्राप्त नहीं होने के कारण जिला पात्रता समिति द्वारा संबंधित अध्यापक को अपात्र करने के कारण माध्यमिक शिक्षक की पद पर नियुक्ति का प्रकरण अमान्य किया गया है। (ख) हिन्दी साहित्य सम्मेलन द्वारा प्रदत्त शिक्षा विशारद योग्यता को व्यावसायिक योग्यता मान्य नहीं किया गया हैं। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं। माननीय सर्वोच्च न्यायालय के पारित आदेश अनुसार 1967 से हिन्दी साहित्य सम्मेलन की मान्यता नहीं है। शेषांश उत्तरांश ''क'' अनुसार। अवमानना प्रकरण 5187/2023 में प्रतिवेदन जमा किया जा चुका है।
उच्च पदों के प्रभार हेतु बी.एड. की अनिवार्यता
[स्कूल शिक्षा]
21. ( क्र. 878 ) श्री योगेन्द्र सिंह (बाबा) : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्राथमिक शिक्षक से माध्यमिक शिक्षक माध्यमिक शिक्षक से उच्च माध्यमिक शिक्षक के उच्च पदों के प्रभार के लिये बी.एड. डिग्री का होना आवश्यक किया गया था तथा जिन शिक्षकों के पास बी.एड. डिग्री नहीं होने पर उन्हें उच्च पदों के प्रभार से वंचित किया गया था? (ख) स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा जारी दिशा-निर्देशों के तहत अभी तक बी.एड. डिग्री नहीं होने पर कितनों को उच्च पदों के प्रभार से किस-किस पद के लिये वंचित रखा गया है सिवनी जिले के आंकड़ों से अवगत कराया जावेगा। (ग) माध्यमिक शिक्षा मण्डल भोपाल द्वारा संचालित स्कूलों में प्राचार्य पद पर प्रतिनियुक्ति पर कौन-कौन विगत पॉच वर्षों से कार्यरत है प्रतिनियुक्ति के क्या नियम है आदाता प्रदाता विभाग द्वारा कब-कब अनापत्ति प्रमाण पत्र जारी किये गये है अवगत कराये तथा नियम विरूद्ध प्रतिनियुक्ति अवधि निरस्त करते हुये अपने वरिष्ठ व्याख्याताओं को प्राचार्य पद का प्रभार प्रदान किया जायेगा। हाँ तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों नहीं स्पष्ट करें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) सिवनी जिलान्तर्गत जानकारी संलग्न परिशिष्ट एक अनुसार है। निरंक (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। प्रतिनियुक्ति नियम परिशिष्ट-दो अनुसार। मण्डल द्वारा संचालित आदर्श विद्यालय भोपाल एवं रीवा में प्राचार्य नियमानुसार प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
प्रशासकीय स्वीकृति के पश्चात निर्माण कार्य का भुगतान
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
22. ( क्र. 886 ) श्री योगेन्द्र सिंह (बाबा) : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) म.प्र. शासन, अध्यात्मक विभाग मंत्रालय, भोपाल द्वारा प्रशासकीय स्वीकृत एवं आवंटन आदेश क्रमांक एफ 3-21/2021/अड़सठ/भोपाल दिनांक 02.12.2021 द्वारा श्रीराम मंदिर पंडितवाड़ी सारंगपुर, तहसील सारंगपुर, जिला-राजगढ़ हेतु प्रदान की गई थी तथा निर्माण एजेंसी लोक निर्माण विभाग द्वारा कार्य करवाया गया था? (ख) उपयोगिता प्रमाण-पत्र प्रदान करने के पश्चात भी स्वीकृत राशि रूपये 14,91,000.00/- का भुगतान लोक निर्माण विभाग द्वारा संबंधित ठेकेदार को नहीं किया गया है तथा भुगतान हेतु कार्यालय कार्यपालन यंत्री, लोक निर्माण विभाग संभाग राजगढ़ द्वारा प्रमुख अभियंता, लोक निर्माण विभाग, निर्माण भवन, भोपाल को लिखने के पश्चात भी आज पर्यन्त तक भुगतान नहीं होने पर दोषियों के विरूद्ध कार्यवाही करते हुए कब तक भुगतान करवाया जायेगा? (ग) स्वीकृत राशि रूपये 14,91,000.00/- राशि के भुगतान के विलंब के लिये दोषियों के विरूद्ध कार्यवाही करते हुये स्वीकृत राशि का भुगतान के संबंध में यथास्थिति स्पष्ट करें।
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। (ख) संचालनालय, धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व, म.प्र. के पत्र क्र. 182/संचा/धर्मस्व/2025 उज्जैन, दिनांक 11 फरवरी 2025 द्वारा पूर्व में स्वीकृत राशि का उपयोगिता प्रमाण पत्र, समर्पित राशि की जानकारी एवं मंदिर के कार्य की अद्यतन स्थिति से अवगत कराने हेतु पत्र लिखा गया, संलग्न परिशिष्ट अनुसार। जिले से जानकारी अपेक्षित है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है (ग) प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
भूमि का लीज पर आवंटन
[राजस्व]
23. ( क्र. 887 ) श्री योगेन्द्र सिंह (बाबा) : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश शासन राजस्व विभाग के पत्र क्रमांक 2400/75/2024/सात/शाखा-3 भोपाल दिनांक 29.11.2024 के पत्र के पश्चात कलेक्टर शिवपुरी द्वारा शासकीय भूमि पटवारी हल्का नं. 125 ग्राम सरजापुर तहसील कोलारस जिला शिवपुरी की भूमि खसरा क्रमांक 582, 583, 585, 586, कुल रकबा 8.16 हेक्टेयर भूमि का प्रस्ताव गौ सरंक्षण गौ संवर्धन दूध डेयरी एवं बकरी पालन हेतु भूमि लीज पर देने का प्रस्ताव शासन को कब भेजा गया है? उक्त प्रस्ताव से अवगत कराएं। (ख) शासकीय भूमि खसरा क्रमांक 582, 583, 585, 586 पर अतिक्रमण हटाने के लिये कब-कब नोटिस प्रदान किये गये स्पष्ट करें। नोटिस के पश्चात भी अतिक्रमण नहीं हटाने पर उनके विरूद्ध क्या एफ.आई.आर. दर्ज करवाकर अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही की गई या नहीं? (ग) शासकीय भूमि पर अतिक्रमण नहीं हटवाने अतिक्रमणकारियों को संरक्षण प्रदान करने के दोषियों के विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही करके शासकीय भूमि से अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही कब तक की जायेगी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) गौ सरंक्षण गौ संवर्धन दूध डेयरी एवं बकरी पालन हेतु भूमि लीज पर देने हेतु आवेदक द्वारा आज दिनांक तक नियमानुसार एवं विहित प्रकिया अनुसार आवेदन नहीं किया गया है, इस कारण प्रस्ताव शासन स्तर पर नहीं भेजा गया है। (ख) तहसील कोलारस अंतर्गत ग्राम सरजापुर में स्थित भूमि सर्वे नं. 583 एवं 585 में कोई अतिक्रमण नहीं है। सर्वे नं. 582 एवं 586 पर अतिक्रमण होने से प्रकरण क्रमांक 0152/3-68/24-25 दर्ज कर म.प्र.भू.रा. संहिता 1959 में दिये गये प्रावधान अनुसार अतिक्रमणकर्ताओं को दिनांक 27.11.2024 से नोटिस जारी किये गये। अतिक्रमणकर्ता द्वारा जवाव प्रस्तुत किया गया। एफ.आई.आर. संबधी कोई कार्यवाही नहीं की गयी। (ग) उपरोक्त शासकीय भूमि पर अतिक्रमण हटाये जाने संबंधी म.प्र.भू.रा. संहिता 1959 की धारा 248 के तहत बेदखली आदेश पारित किया जा चुका है, अतिक्रमण हटाने, की कार्यवाही प्रचलित है। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता है।
सोन नदी के दोनों तटों में घाट निर्माण
[पर्यटन]
24. ( क्र.
910 ) श्री
बिसाहूलाल
सिंह : क्या
राज्य
मंत्री, पर्यटन
महोदय यह
बताने की कृपा
करेंगे कि (क) अमरकंटक
से निकलने
वाली सोनभद्र
नदी जो कि जिला
मुख्यालय
अनूपपुर के
पास से गुजरती
हैं, जिसमें
आस-पास के
ग्रामीणों
एवं अनूपपुर
शहर के
नागरिकों के
आस्था का
केन्द्र हैं, यहां
पर लोग हर तीज
त्योहारों व
लोगों के मृत्यु
होने पर अंत्योष्ठि
व क्रियाकर्म
करते है, जिसके लिए
विगत कई
वर्षों से
लगातार
अधोहस्ताक्षरी
के द्वारा
पत्राचार कर
सोन नदी के दोनों
तटों में घाट
निर्माण
कराकर दोनों
ओर सोनांचल
पर्यटन केन्द्र
विकसित किये
जाने का मांग
कितनी बार की
गयी हैं तथा
इस संबंध में
कितनी बार
विधानसभा में
ध्यान
आकर्षित कराये
जाने हेतु
विधानसभा में
तारांकित
प्रश्न क्र. 2214
दिनांक 10/07/2014 के माध्यम
से एवं याचिका
व ध्यानाकर्षण
के साथ-साथ
संबंधितों का
पत्राचार कर
स्वीकृत
कराये जाने का
अनुरोध किया
गया हैं? यदि हाँ, तो अब
तक स्वीकृत
किये जाने की
क्या
कार्यवाही की
गई है?
जानकारी
उपलब्ध
करावे। (ख) प्रश्नांश
(क) अनुसार
जिला प्रशासन
अनूपपुर, पर्यटन
मंत्री
म.प्र.शासन व
माननीय मुख्यमंत्री
म.प्र. शासन के
माध्यम से
कितनी बार
मांग की गई
हैं
किन्तु
अभी तक
संज्ञान में
नहीं लेने के
क्या कारण है? क्या
उपरोक्त सोन
नदी के दोनों
तटों में घाट
निर्माण
कराकर पर्यटन
केन्द्र
विकसित किया
जाना जनहित
में हैं? यदि हाँ, तो कब
तक और किस
विभाग के माध्यम
से स्वीकृत
कराये जाने का
प्रावधान
शासन द्वारा किया
जा रहा हैं? (ग) प्रश्नांश
(क) एवं (ख) अनुसार
कलेक्ट्रेट
के पास सोन
नदी के दोनों
तटों में घाट
निर्माण के
साथ-साथ
पर्यटन केन्द्र
व चौपाटी के
निर्माण होने
से अनूपपुर
शहर के लोगों
का
प्रात:कालीन
सैर व व्यायाम
से लोगों को
स्वास्थ्य
लाभ मिलने के
उद्देश्य से
पर्यटन केन्द्र
विकसित किया
जाना जनहित
में होगा? यदि
हाँ,
तो कब तक स्वीकृत
किया जाएगा? (घ) प्रश्नांश
(क), (ख) एवं (ग) अनुसार
उक्त स्थल
में क्षेत्र
के आस-पास के
लोगों के
द्वारा लोगों
के दिवंगत
होने के
उपरांत अंत्येष्टि
के बाद राख, फूल
का विसर्जन एवं
कुछ लोगों को
मृत्यु
उपरांत यही पर
अंत्येष्टि
भी की जाती है
इस कारण से इस
स्थल में सोन
नदी के दोनों
तटों में घाट
निर्माण व सोनांचल
पर्यटन केन्द्र
विकसित कराये
जाने के संबंध
में कब तक स्वीकृति
दी जाएगी?
राज्य
मंत्री, पर्यटन
( श्री
धर्मेन्द्र
भाव सिंह लोधी
) : (क)
जी हाँ।
वर्तमान में
कोई योजना स्वीकृत
नहीं है। (ख) प्रश्नांश
(क) अनुसार।
शेष का प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता। (ग) प्रश्नांश
(क) अनुसार।
शेष का प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता। (घ) प्रश्नांश
(क) अनुसार।
शेष का प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता।
भूमि का डायवर्सन
[राजस्व]
25. ( क्र. 977 ) श्री अभय मिश्रा : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रीवा व मऊगंज जिले में डायवर्सन की कार्यवाहियां की गई तो वर्ष 2020 से प्रश्नांश दिनांक तक गई भूमियों के खसरा नम्बर व डायवर्सन हेतु प्राप्त राशि का विवरण तहसीलवार देवें? (ख) प्रश्नांश (क) के तारतम्य में खसरे में दर्ज नम्बरों के आधार पर नक्शा तरमीम कितने प्रतिशत की जा चुकी है एवं कितनी लंबित है का विवरण तहसीलवार, जिलेवार देवें। (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के साथ अन्य अविवादित राजस्व प्रकरणों के निराकरण बावत् राजस्व विभाग के पीठासीन अधिकारियों द्वारा कब-कब, कहां-कहां राजस्व ग्रामों में कैम्प/शिविर लगाकर प्रकरणों के निराकरण की कार्यवाही की गई इस हेतु उपयोग किये गये वाहन के नम्बर भ्रमण कार्यक्रम की डायरी, वाहन लागबुक एवं यात्रा देयक कितने प्रस्तुत किये गये का विवरण प्रश्नांश (क) की अवधि अनुसार देवें यात्रा भत्ता एवं डीजल के नाम पर पीठासीन अधिकारियों द्वारा कितनी राशि प्राप्त की गई उपरोक्त अवधि अनुसार वर्षवार बतायें? (घ) प्रश्नांश (क) अनुसार खसरे नम्बर डायवर्सन की कार्यवाही नहीं की गई शासन को राजस्व की क्षति पहुँचायी गई प्रश्नांश (ख) अनुसार नक्शा तरमीम दर्ज खसरे नम्बर अनुसार नहीं किये गये एवं प्रश्नांश (ग) अनुसार राजस्व पीठासीन अधिकारियों द्वारा फर्जी तरीके से बिल व्हाउचर तैयार कर शासन की राशि का गबन किया गया प्रकरणों का राजस्व ग्रामों में शिविर लगाकर निराकरण नहीं किया गया जबकि शासन द्वारा राजस्व अभियान चलाकर प्रकरणों के निराकरण बावत् निर्देश दिये गये, इन सब अनियमितताओं के जिम्मेदारों पर कार्यवाही बावत् क्या निर्देश देंगे बतायें अगर नहीं तो क्यों?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) रीवा जिले अंतर्गत वर्ष 2018 से डायवर्सन की कार्यवाहियां निम्नानुसार है:-1- भू-राजस्व का निर्धारण एवं पुनर्निर्धारण नियम 2018 के अनुरूप व्यपवर्तन की सूचना की प्रक्रिया को पूर्णतः ऑनलाईन बनाया गया है। 2- RCMS PORTAL पर ऑनलाईन प्रकरण संख्या एवं राशि की जानकारी उपलब्ध है। महूगंज जिले में वर्ष 2020 से 1615 प्रकरणों में 3478880.13 डायवर्सन राशि प्राप्त की गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-1, 2, 3 में है। (ख) दर्ज खसरा नम्बरों के आधार पर नक्शा तरमीम जिला रीवा में 100%, सेमरिया-0%, रायपुर तहसील-हुजूर-52%, गुढ-कर्चुलियान-33%, सिरमौर-64%, मनगवां 46%, त्योंथर-24%, जवा-100% एवं जिला रीवा में लंबित तरमीम तहसील, हुजूर-47%, गुढ-0%, सेमरिया-0%, रायपुर कर्चुलियान-65%, सिरमौर-36%, मनगवां-54%, त्योंथर-76%, जवा-0% हैं। महूगंज जिले में मऊगंज में नक्शा तरमीम 19.36, लंबित 80.64, नईगढ़ी में नक्शा 40 लंबित 60 तथा हनुमना में नक्शा तरमीम 27.12 एवं लंबित 62.88 प्रतिशत है। (ग) अविवादित राजस्व प्रकरणों के निराकरण हेतु राजस्व ग्रामों में दिनांक 16.01.2024 से 26.01.2025 तक रोस्टर अनुसार राजस्व ग्रामों में कैम्प लगाकर प्रकरणों के निराकरण की कार्यवाही नियमानुसार की गई। राजस्व अधिकारियों को शासन द्वारा निर्धारित गाइड लाईन के अनुसार वाहन एवं डीजल की उपलब्धता करायी जाती है। पृथक से कोई भी यात्रा भत्ता या डीजल इसके लिये देय नहीं होता है। (घ) राजस्व अभियानों का आयोजन कराया गया है। प्रश्नांश में उल्लेख अनुसार कोई शिकायत प्रकरण संज्ञान में नहीं आने से शेष प्रश्न उद्भुत नहीं होता है।
पार्वती कालीसिंध चंबल लिंक परियोजना
[जल संसाधन]
26. ( क्र. 1035 ) श्री भैरो सिंह बापू : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पार्वती कालीसिंध चंबल लिंक परियोजना से आगर एवं शाजापुर जिले के कितने ग्रामों को लाभ मिलेगा ग्राम के नाम सहित जानकारी देवें? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार उक्त परियोजना में कब से कार्य प्रारंभ होगा एवं परियोजना कितने वर्षों में पूर्ण होगी?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) पार्वती कालीसिंध चंवल लिंक परियोजना अंतर्गत 02 योजनाएँ प्रस्तावित है जिनसे आगर मालवा जिले के 21 ग्राम एवं शाजापुर जिले के 66 ग्राम लाभान्वित होंगे। ग्रामों की जिलेवार सूची संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। वास्तविक निर्धारण सर्वेक्षण उपरांत हो सकेगा। (ख) वर्तमान में कार्य प्रारंभ एवं पूर्ण करने की समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
शासन निर्देश का पालन प्रतिवेदन
[राजस्व]
27. ( क्र. 1081 ) श्री केशव देसाई : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या कलेक्टर भोपाल के पत्र क्रमांक-77/भू-अ/2024 दिनांक 18.06.2024 द्वारा आवेदन दिनांक 17.05.2024 पूर्ण परीक्षण के बाद निराकरण हेतु प्रमुख सचिव राजस्व विभाग का अभिमत चाहा गया? (ख) क्या विभागीय परिपत्र क्रमांक एफ 4/12/2024/सात-2 दिनांक 16 मई, 2024 के आदेश क्रम में कार्यवाही कर अवगत कराने हेतु पत्र क्रमांक-1012/2135075/सात-2, दिनांक 12.09.2024, द्वारा शासन ने निर्देश दिया? (ग) क्या भू-धारक/वारिसों को (ख) के आदेश की कंडिका 363 (4) अनुसार प्रतिकर देय है? (घ) कृपया (ख) के आदेश एवं शासन निर्देश के पालन पत्र की प्रति दें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। विभागीय परिपत्र के क्रम में नियमानुसार कार्यवाही के निर्देश दिए गए है। (ग) जी नही। प्रश्नांश (ख) के संदर्भ में माननीय सर्वोच्च न्यायालय के आदेश की कण्डिका 363 (4) के अनुसार भू-धारक/वारिसों को प्रतिकर प्रदान किए जाने के प्रावधान प्रकरण लागू नहीं होते है। (घ) प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित म.प्र.शासन राजस्व विभाग का परिपत्र दिनांक 16.05.2024 एवं पत्र दिनांक 12.09.2024 में माननीय सर्वोच्च न्यायालय की एस.एल.पी. (सी) क्रमांक 9036-903/2016 इंदौर डवलपमेंट एथोरटी बनाम मनोहर लाल एवं अन्य में भूमि अर्जन, पुनर्वासन और पुनर्व्यवस्थापन में उचित प्रतिकर और पारिदर्शिता का अधिकार अधिनियम 2013 की धारा 24 की विवेचना के आधार पर नियमानुसार कार्यवाही के निर्देश है। भू-धारक द्वारा माननीय सर्वोच्च न्यायालय के आदेश की कण्डिका 363 (4) अनुसार मुआवजा की मांग कर आवेदन पत्र प्रस्तुत किया गया। चूंकि भू-अर्जन प्रकरण में अवार्ड उपरांत भू-धारक को मुआवजा प्राप्त करने हेतु विभाग द्वारा तत्समय सूचित किए जाने के उपरांत भू-धारक द्वारा मुआवजा प्राप्त करने के संबंध में कोई कार्यवाही नहीं की गई। ऐसी स्थिति माननीय न्यायालय द्वारा पारित आदेश की कण्डिका 363 (4) में वर्णित दिशा निर्देश भू-धारक के प्रकरण में प्रभावशील नहीं होने से कलेक्टर एवं भू-अर्जन अधिकारी द्वारा भू-धारक को वर्ष 1995 की स्थिति में प्रतिकर भुगतान का निर्णय लिया गया है। म.प्र.शासन राजस्व विभाग का परिपत्र क्रमांक एफ 4/12/2024/सात-2 दिनांक 16 मई 2024 एवं पत्र क्रमांक 1012/213575/सात-2 दिनांक 12.09.2024 तथा पालन की प्रति संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
स्कूलों में मरम्मत के लिये राशि आवंटन
[स्कूल शिक्षा]
28. ( क्र. 1093 ) श्री फूलसिंह बरैया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ग्वालियर जिले में वित्तीय वर्ष 2022-23 में समग्र शिक्षा अभियान अंतर्गत हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों में मरम्मत के लिये अनुरक्षण मद से कुल कितनी राशि प्रदाय की गई थी? (ख) जिले के कुल कितने हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल हैं संख्या बतावें तथा प्रत्येक विद्यालय को कितनी-कितनी राशि आवंटित की गई थी स्कूलवार संख्या बतावें? (ग) क्या जिला शिक्षा अधिकारी ग्वालियर के द्वारा साठ-गांठ कर गंभीर आर्थिक अनियमितता तथा भ्रष्टाचार किया गया है? जिसकी शिकायत ई.ओ.डब्ल्यू. ग्वालियर में लंबित हैं? (घ) क्या शासन द्वारा निर्धारित मापदण्डों एवं दिशा-निर्देशों के विपरीत कार्यवाही करने से संबंधित जिला शिक्षा अधिकारी ग्वालियर को तत्काल निलंबित कर विभागीय जांच संस्थित करेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी निरंक है। (ख) प्रश्नाधीन जिला अंतर्गत 77 शासकीय हाईस्कूल एवं 65 शासकीय हायर सेकेण्डरी स्कूल संचालित है। उत्तरांश 'क' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। (घ) गुण-दोष के आधार पर कार्यवाही की जाती है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
सिविल अस्पताल में उन्नयन एवं महिला डॉक्टर की पदस्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
29. ( क्र. 1196 ) श्रीमती प्रियंका पैंची : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र चाचौड़ा के नगर कुंभराज,मकसूदनगढ़ एवं नगर बीनागंज के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों से जिला अस्पताल की दूरी लगभग 50 से 60 कि.मी. है इस आधार पर प्रश्नकर्ता द्वारा इन स्वास्थ्य केन्द्रों को सिविल अस्पताल हेतु उन्नयन की मांग की गई थी l इनके उन्नयन के लिए कोई प्रस्ताव विचाराधीन है यदि हाँ, तो इसका लाभ क्षेत्रवासियों को कब तक मिल पाएगा? यदि नहीं, तो क्यों? (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित तीनों नगरों में महिलाओं से संबंधित बीमारियों के उपचार के लिए एक भी महिला डॉक्टर (MBBS) उपलब्ध नहीं है क्यों? (ग) विधानसभा चाचौड़ा के तीनों नगरों में महिला डॉक्टर (MBBS) की नवीन पदस्थापना किया जाना संभव है? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। जी नही, वर्तमान में उक्त संस्थाओं के उन्नयन का प्रस्ताव विभागीय कार्ययोजना में सम्मिलित नहीं है, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र कुंभराज में 01 नियमित व 01 बॉण्डेड महिला चिकित्सक पदस्थ है, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र मकसूदनगढ़ में 01 नियमित महिला चिकित्सक पदस्थ है। सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बीनागंज में महिला चिकित्सक का पद रिक्त है। रिक्त पदों की पूर्ति एक निरंतर प्रक्रिया है, निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है। (ग) उत्तरांश ''ख'' के परिप्रेक्ष्य में लेख है कि चिकित्सकों की उपलब्धता अनुसार पदस्थापना की कार्यवाही की जाती है। रिक्त पदों की पूर्ति एक निरंतर प्रक्रिया है, निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है।
परियोजना के कार्य को पूरा करना
[जल संसाधन]
30. ( क्र. 1198 ) श्रीमती प्रियंका पैंची : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) गुना जिले की विधानसभा क्षेत्र चाचौड़ा के अंतर्गत पार्वती-कालीसिंध-चंबल लिंक परियोजना कुम्भराज के टेंडर का कार्य कब तक पूर्ण होगा? (ख) इस परियोजना का कार्य कब तक प्रारंभ होगा? (ग) इस परियोजना से वंचित ग्रामों को लाभ हेतु शासन की क्या योजना है?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) गुना जिले की विधानसभा क्षेत्र चाचौड़ा में पार्वती-कालीसिंध-चंबल लिंक परियोजना अंतर्गत कुम्भराज वृहद सिंचाई परियोजना की डीपीआर केन्द्रीय जल आयोग, नई दिल्ली को स्वीकृति हेतु प्रेषित की गई है, स्वीकृति उपरान्त निविदा आमंत्रण की कार्यवाही संभव है। (ख) वर्तमान में समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) परियोजना के सर्वेक्षण उपरान्त डीपीआर तैयार करने के उपरान्त, लाभांवित क्षेत्र का निर्धारण किया जाना संभव है। वर्तमान में वंचित ग्रामों को लाभ दिये जाने के संबंध में बताया जाना संभव नहीं है।
निरस्त आवेदन पत्रों की जानकारी
[राजस्व]
31. ( क्र. 1207 ) श्री प्रदीप पटेल : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मऊगंज जिले में जिला बनने से प्रश्न दिनांक तक खसरा सुधार, नामांतरण, फौती आवेदन, नाम सुधार, वारिसाना और बंटवारा के कितने आवेदन कलेक्टर, अपर कलेक्टर, एसडीएम और तहसीलदारों की अदालत में आए? (ख) इन आवेदनों में कितने प्रकरणों का निराकरण किया गया और कितने अभी तक लंबित हैं? क्या एक ही दिन में कई सैकड़ों आवेदनों को बिना कारण बताए अलग-अलग अदालतों से निरस्त कर दिया गया? (ग) यदि हाँ, तो ऐसे कितने-कितने आवेदन किस- किस अधिकारी की कोर्ट से संबंधित हैं जिन्हें निरस्त किये गए आवेदनकर्ता के नाम उसके गांव और प्रकरण सहित जानकारी उपलब्ध कराएं।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) मऊगंज जिला बनने के बाद से प्रश्न दिनांक तक जानकारी निम्नानुसार है -
क्र. |
न्यायालय का नाम |
खसरा सुधार/नाम सुधार |
नामांतरण/वारिसाना |
बंटवारा |
1 |
कलेक्टर |
306 |
- |
|
2 |
अपर कलेक्टर |
|
|
|
3 |
अनविभागीय अधिकारी राजस्व मऊगंज |
1371 |
|
|
4- |
अनुविभागीय अधिकारी राजस्व हनुमना |
480 |
|
|
5- |
तहसीलदार मऊगंज |
0 |
6723 |
1936 |
6- |
तहसीलदार नईगढी |
0 |
4286 |
1270 |
7- |
तहसीलदार हनुमना |
0 |
7534 |
1934 |
योग:- |
1895 |
18543 |
5140 |
(ख) प्रकरणों के निराकरण/लंबित होने की न्यायालयवार स्थिति निम्नानुसार हैं:-
क्र. |
न्यायालय का नाम |
खसरा सुधार/नाम सुधार |
नामांतरण/वारिसाना |
बंटवारा |
|||
|
|
निराकृत |
लंबित |
निराकृत |
लंबित |
निराकृत |
लंबित |
1 |
कलेक्टर |
288 |
18 |
|
|
|
|
2 |
अपर कलेक्टर |
|
|
|
|
|
|
3 |
अनुविभागीय अधिकारी राजस्व मऊगंज |
967 |
404 |
|
|
|
|
4 |
अनुविभागीय अधिकारी राजस्व हनुमना |
185 |
295 |
|
|
|
|
5 |
तहसीलदार मऊगंज |
0 |
0 |
5713 |
1010 |
1377 |
559 |
6 |
तहसीलदार नईगढी |
0 |
0 |
4286 |
0 |
1270 |
0 |
7 |
तहसीलदार हनुमना |
0 |
0 |
6766 |
768 |
1504 |
430 |
|
|
1152 |
699 |
16765 |
1778 |
4151 |
989 |
बिना कारण एक ही दिन में कोई आवेदन निरस्त नहीं किये गये है। भू राजस्व संहिता 1959 में विहित प्रावधानों के अनुसार आवेदनों का निराकरण किया गया है। (ग) उत्तरांश 'ख' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जनसुनवाई में प्राप्त आवेदनों का निराकरण
[राजस्व]
32. ( क्र. 1208 ) श्री प्रदीप पटेल : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मऊगंज जिला बनने से प्रश्न दिनांक तक कलेक्टर, एसडीएम और तहसीलदारों के यहाँ जनसुनवाई में कितने आवेदन आए? व्यक्तिवार प्रत्येक आवेदन की एक प्रति उपलब्ध कराएं। (ख) अधिकारियों को प्राप्त शिकायतों में कितने आवेदनों का निराकरण किया गया? जिन आवेदनों का अब तक निराकरण नहीं किया गया उसका क्या कारण है? कब तक निराकरण किया जायेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) मऊगंज जिला बनने से प्रश्न दिनांक तक कलेक्टर, एसडीएम और तहसीलदारों के यहाँ जनसुनवाई में प्राप्त आवेदन की संख्या 1097 है। प्राप्त आवेदनों की प्रतियां पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) जिला स्तर पर जनसुनवाई में प्राप्त आवेदन 1097 में से 894 आवेदनों का निराकरण किया गया है। शेष 203 आवेदन संबंधित विभाग को निराकरण हेतु प्रेषित किये गए है, संबंधित विभाग द्वारा जांच प्रतिवेदन प्राप्त होने पर निराकरण कर दिया जावेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं।
खेल सामग्री खरीदी में घोटाला
[स्कूल शिक्षा]
33. ( क्र. 1210 ) श्री प्रदीप पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या "पत्रिका" सतना में खेल सामग्री खरीदी घोटाले की खबर छपी थी? क्या इसकी जाँच में अनियमितता पाई गई थी? (ख) क्या इस मामले में लीपापोती करने के लिये डीईओ सतना ने जांच अधिकारियों को पत्र क्रमांक 2423 दिनांक 03/02/2023 जारी किया जाकर जानकारी मांगी गई है? (ग) क्या दिनांक 05/01/2023 को प्रभारी मंत्री को जिले के 255 स्कूलों में मरम्मत के लिये प्राप्त 7.66 करोड़ के फर्जी भुगतान की शिकायत की गई थी? (घ) क्या प्रश्नांश (ग) की जांच कराई गई है? यदि कराई गई है तो भुगतान किये गये सभी बिलों की स्कूलवार प्रमाणित प्रति उपलब्ध करावें? (ड.) प्रश्नांश (क), (ख) का जाँच प्रतिवेदन उपलब्ध कराते हुए बतायें दोषी अधिकारियों पर कब तक अनुशासनात्मक कार्यवाही करते हुए गबन राशि की वसूली कर ली जायेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) सत्र 2021-22 में सतना जिले के सभी जनपद शिक्षा केन्द्रों में खेल सामग्री खरीदी के संबंध में अनियमितता की शिकायत कमिश्नर रीवा संभाग के पत्र क्र./6/वि/यो/2022/2520 दिनांक 18 अगस्त 2022 के द्वारा जांच हेतु पत्र कलेक्टर सतना के माध्यम से प्राप्त हुआ। पत्र की प्रति संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। उक्त पत्र मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत सतना द्वारा जारी किया गया है। (ग) प्रकरण में शासन से प्राप्त शिकायत पत्र क्रमांक 1047/785208/2022/20-4 भोपाल दिनांक 3.10.2024 के संदर्भ में संचालनालय से प्रेषित पत्र के क्रम में संभागीय आयुक्त रीवा द्वारा जांच संस्थित की गई है। (घ) प्रश्नाधीन प्रकरण में आयुक्त संभाग रीवा द्वारा जांच संस्थित की गई है। जांच प्रतिवेदन अप्राप्त है। अतः शेषांश उदभूत नहीं होता। (ड.) उत्तरांश 'घ' के प्रकाश में गुण-दोष के आधार पर कार्यवाही किये जाने की व्यवस्था है। अतः शेषांश उद्भूत नहीं होता।
पर्यटन क्षेत्र विकसित किया जाना
[पर्यटन]
34. ( क्र. 1216 ) डॉ. तेजबहादुर सिंह चौहान : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि उज्जैन में आगामी वर्षों में सिंहस्थ महापर्व की दृष्टि से नागदा खाचरौद क्षेत्र सहित सम्पूर्ण उज्जैन की ओर आने वाले प्रमुख मार्ग पर पर्यटन क्षेत्र विकसित करने की दृष्टि से क्या योजना बनाई गयी है?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : जी हाँ। सिंहस्थ-2028 को दृष्टिगत रखते हुए उज्जैन शहर के आस-पास के 18 गांवों में होम स्टे निर्मित कराये जा रहे हैं। ग्रामों की सूची संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
अतिथि शिक्षकों की विभागीय परीक्षा की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
35. ( क्र. 1218 ) डॉ. तेजबहादुर सिंह चौहान : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) तात्कालिक मुख्यमंत्री द्वारा 02/09/2023 को भोपाल में अतिथि शिक्षकों की महापंचायत बुलाकर अलग से विभागीय परीक्षा करवाकर पद स्थाई करने की घोषणा की गयी थी, वर्तमान मुख्यमंत्री माननीय द्वारा भी इस विषय में आश्वासन दिया गया है क्या इस संदर्भ में कोई प्रक्रिया प्रारम्भ की गयी है? (ख) क्या इस घोषणा के सत्र 2025-2026 तक मूर्त रूप लेने की सम्भावना है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी नहीं। पात्रता परीक्षा के संबंध में योजना बनाने की घोषणा की गई थी। भर्ती नियमों में पात्रता परीक्षा उपरांत चयन परीक्षा के माध्यम से आरक्षण प्रावधानों के आधार पर नियुक्ति का प्रावधान है। अतः अतिथि शिक्षकों के लिये पृथक से पात्रता परीक्षा आयोजित करने संबंधी कोई कार्यवाही प्रस्तावित नहीं है। (ख) जी नहीं।
प्रश्न क्रमांक 357 दिनांक 18/12/2024 का पूर्ण उत्तर
[राजस्व]
36. ( क्र. 1229 ) डॉ. हिरालाल अलावा : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के प्रश्न-क्रमांक 357 दिनांक 18/12/2024 के प्रश्नांश (ख) में दस्तावेज दिनांक 30/11/1949 एवं खसरा नंबर 83 से संबंधित जानकारी उत्तरांश (ख) में नहीं दिए जाने एवं अन्य दस्तावेज एवं अन्य खसरों की जानकारी उत्तरांश (ख) में दिए जाने का क्या कारण है विभाग इसके लिए किसे दोषी एवं जिम्मेदार मानता है? (ख) 1950 के पहले जिन कृषकों को मौरूसी कृषक माना गया उन्हें भू-राजस्व संहिता 1954 एवं भू-राजस्व संहिता 1959 की किस-किस धारा के तहत भू-स्वामी हक प्रदान किया गया, इस तरह की भूमि को शासकीय पट्टे की भूमि माने जाने का क्या प्रावधान संहिता में है? (ग) राजस्व ग्रामों की किन-किन प्रयोजनों एवं किन-किन मदों में दर्ज जमीनों को मध्यप्रदेश राजपत्र में भा.व.अ. 1927 की धारा 29 के तहत दिनांक 26 सितंबर 1955 एवं दिनांक 08 अगस्त 1958 को संरक्षित वन अधिसूचित किया, उसकी प्रविष्टी प्रश्नांकित दिनांक तक भी खसरा पंजी के कॉलम 12 में दर्ज नहीं करने का क्या कारण है?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) पंजीयन अधिनियम 1908 के प्रावधानों के अनुसार दस्तावेज (रजिस्ट्री) का प्रस्तुतीकरण व पंजीयन दिनांक में अंतर है, अधिनियम की धारा 17 से धारा 58 तक के अनुसार अनिवार्य पंजीयन हेतु प्रस्तुत दस्तावेजों का उपस्थापन का समय व धारा 60 के अनुसार पंजीयन का प्रमाण पत्र दिये जाने का समय पृथक-पृथक हो सकता है। प्रश्नांश 'ख' में दिये गये उत्तर में स्पष्ट रूप से लिखा गया है कि निष्पादक का दस्तावेज प्रस्तुति दिनांक 30/11/1949 है, जो तत्कालिन उप पंजीयक द्वारा लगाई जाने वाली सीले या मुद्रा में (कार्यालय में उपलब्ध द्वितीय प्रति अभिलेखों) में लिखा गया है तथा दस्तावेज के अंतिम पृष्ठ पर पंजीयन दिनांक 06/12/1949 अंकित किया गया है, जो कि पूर्णत:सत्य है। जहां तक खसरा नं. 83 की जानकारी विधान सभा क्रं.357 के उत्तर में दी गई है। अन्य संबंधित खसरों की जानकारी भी दी गई है। जिससे कोई दोषी नहीं है। (ख) म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 यथा संशोधित वर्ष 2018 की धारा 158 भूमि स्वामी हक प्राप्त किया गया है। धारा 57 के अंतर्गत स्वामित्व के विवादों का निराकरण किया जाता है। (ग) म.प्र. शासन वन विभाग के ब्लेकेंट नॉटीफिकेशन क्रमांक/9-एक्स-58 दिनांक 10.07.1958 द्वारा घोषित संरक्षित वन को वर्ष 1965, 1966, 1967 एवं 1968 में प्रकाशित अधिसूचना द्वारा वनमण्डल नर्मदापुरम अंतर्गत कुल 133 वनखण्ड रकबा 79371.107 हे. भूमि को भारतीय वन अधिनियम की धारा-4 में अधिसूचित कर आरक्षित वन बनाने हेतु विनिश्चय किया गया। विस्तृत विवरण हेतु प्रपत्र एवं अधिसूचना की छायाप्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। भारतीय वन अधिनियम 1927 की धारा-4 के प्रकाशन पश्चात आगे की कार्यवाही न होने से उसकी प्रविष्टी प्रश्नांकित दिनांक तक खसरा पंजी के कॉलम 12 में दर्ज नहीं हो सकी।
संशोधित अवार्ड जारी करना
[राजस्व]
37. ( क्र. 1275 ) श्री फूलसिंह बरैया : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या अतारांकित प्रश्न क्रमांक 520 दिनांक 03 जुलाई 2024 के उत्तर अनुसार तहसील सिहोरा जबलपुर के वार्ड क्रमांक-7 खसरा क्रमांक-127 की भूमि की लोकेशन आवासीय है एवं खसरा क्रमांक-127/2 इस भूमि का बटांक है? (ख) प्रश्नांश (क) यदि हाँ, तो, अनुविभागीय अधिकारी सिहोरा के पत्र क्रमांक-465/री-2/अविअ/2014 दिनांक 04/06/2014 अनुसार भू-धारक को आवासीय दर से प्रतिकर भुगतान हेतु संशोधित अवार्ड कब जारी किया जावेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जिला जबलपुर तहसील सिहोरा के अंतर्गत मौजा सिहोरा वार्ड क्रमांक- 7 का खसरा क्रमांक- 127 में से अर्जित बटांक खसरा क्रमांक 127/2 में वर्तमान में रोड बनी हुई हैं, आवासीय नहीं हैं। भू-अर्जन के समय भी अर्जित भूमि की लोकेशन आवासीय नहीं थी। खसरा क्रमांक 127/2, खसरा क्रमांक 127 का बटांक है। (ख) भू अर्जन अधिकारी सिहोरा के राजस्व प्रकरण क्रमांक 01/अ-82/2014-15 में पारित अवार्ड आदेश दिनांक 16/06/2015 के अनुसार खसरा क्रमांक 127/2 अर्जित रकबा 0.081 हे. का मुआवजा रूपये 1321991.00 भू-धारक/हितग्राही सौरभ कुमार पिता राजेश कुमार निवासी सिहोरा के नाम पर बना है जिसका भुगतान किया जा चुका है अवार्ड की छायाप्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है।
निलंबन की कार्यवाही
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
38. ( क्र. 1318 ) श्री भंवर सिंह शेखावत : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शा.चि.महाविद्यालय से सम्बंधित प्रकरण सी.एम. हेल्प लाइन क्र. 24643088 दिनांक 09/10/2023 में एक महिला नर्सिंग ऑफिसर ने चिकित्सालय अधीक्षक द्वारा किये गए मानसिक प्रताड़ना एवं धनराशि, पैसों की मांग करने वाले के विरूद्ध शिकायत की गयी है? (ख) क्या जब शिकायत अक्टूबर 2023 की है तो फिर 07 वर्ष पूर्व 28/01/2016 की नोटशीट का हवाला देकर दिनांक 22 अक्टूबर 2024 को उक्त शिकायत के सम्बन्ध में 'नॉन कनेक्टेड क्लोज' के लिए अनुमोदित प्रक्रिया नोटशीट क्रमांक 06/1379/SPSM/2016 दिनांक 28/01/2016 के अनुक्रम में शिकायत को क्यों एवं किन परिस्थितियों में किनके द्वारा बंद किया गया है? (ग) चिकित्सा महाविद्यालय की एक महिला नर्सिंग ऑफिसर के शोषण से सम्बंधित गंभीर शिकायत पर अधीक्षक डॉ.प्रदीप मिश्रा के विरूद्ध जाँच क्यों नहीं की गयी? शिकायत को एक वर्ष से अधिक समय तक क्यों लंबित रखा गया एवं प्रकरण को महिलाओं से हुए दुर्व्यवहारों की रोकथाम के लिए गठित समिति के समक्ष क्यों नहीं लाया गया? इसके लिए कौन जवाबदेह है? (घ) क्या विभागीय प्रमुख सचिव/आयुक्त महिला उत्पीड़न जैसे गंभीर अपराधों के लिए दोषी डॉ. प्रदीप मिश्रा को तत्काल निलंबित करते हुए उक्त प्रकरण की जाँच राष्ट्रीय महिला आयोग से कराया जाकर पीड़ित नर्सिंग ऑफिसर को न्याय दिलाया जाना सुनिश्चित करेगा?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख) शिकायत पर संबंधित अधिकारी द्वारा संतुष्टि परीक्षण हेतु शिकायतकर्ता से पृथक तिथियों में वस्तुस्थिति से अवगत करने हेतु 05 से अधिक बार प्रयास करने पर भी शिकायतकर्ता से संपर्क न होने से शिकायत को 'नॉन कनेक्टेड क्लोज' के लिए अनुमोदित प्रक्रिया नोटशीट क्रमांक 06/1379/ SPSM/2016 दिनांक 28/01/2016 के अनुक्रम में शिकायत को बंद किया गया है। (ग) सी.एम. हेल्पलाइन शिकायत क्रमांक 24643088 दिनांक 09/10/2023 में शिकायतकर्ता ने निराकरण हो जाने के संबंध में अपनी ओर से सी.एम. हेल्पलाइन पोर्टल पर टीप-''शिकायतकर्ता द्वारा बताया गया कि आवेदक शिकायत को बंद करवाना चाहते है शिकायत का निराकरण हो चुका है शिकायत को बंद किया जाए'' दिनांक 22/05/2024 को दर्ज कराई गई थी। दिनांक 22/05/2024 को सी.एम. हेल्पलाइन शिकायत की स्थिति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-1 अनुसार एवं आंतरिक परिवाद समिति द्वारा शिकायत के संबंध में की गई जांच रिपोर्ट दिनांक 10/03/2025 की प्रति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-2 अनुसार। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) उत्तरांश 'ग' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
एयर एम्बूलेंस सेवा
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
39. ( क्र. 1325 ) डॉ. चिंतामणि मालवीय : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश में एयर एम्बुलेंस सेवा का प्रारंभ से लेकर अब तक कितने लोगों ने लाभ लिया है, इनमें आयुष्मान कार्ड धारक कितने हैं तथा गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले कितने लाभार्थी हैं। (ख) एयर एम्बुलेंस सेवा को अब तक कितना भुगतान किया गया।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) मध्यप्रदेश में एयर एम्बुलेंस सेवा का प्रारंभ दिनांक से कुल 52 लोगों ने लाभ लिया है, जिसमें से कुल - 27 आयुष्मान कार्ड धारक है। गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले लाभार्थी का डाटा पृथक से संधारित नहीं किया जाता है। (ख) एयर एम्बुलेंस के संचालन हेतु सेवा प्रदाता संस्था को सेवा प्रारंभ से प्रश्न दिनांक तक कुल राशि रूपये 8,27,03,768/- (आठ करोड़ सत्ताईस लाख तीन हजार सात सौ अड़सठ रूपये मात्र) का भुगतान किया गया है।
चिकित्सा विशेषज्ञ के रिक्त पद एवं पद पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
40. ( क्र. 1354 ) श्री भंवर सिंह शेखावत : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में स्थित समस्त शासकीय चिकित्सालय में चिकित्सा विशेषज्ञ के कितने पद रिक्त हैं। कृपया चिकित्सालय के नाम सहित जानकारी देवें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में जन सुविधा एवं आम आदमी के स्वास्थ्य/चिकित्सा के दृष्टिगत शासकीय चिकित्सालयों में रिक्त पदों पर चिकित्सा विशेषज्ञ की पूर्ति कब तक होगी।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) वर्तमान में विशेषज्ञों के कुल स्वीकृत, कार्यरत एवं रिक्त पदों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार मानव संसाधन के राज्य स्तरीय मानक वर्ष 2024 के निर्धारित मापदण्ड अनुसार चिकित्सालयों में विभिन्न श्रेणीयों के स्वीकृत मापदण्ड जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार संस्थावार स्वीकृत पदों की कार्यवाही प्रचलन में है। (ख) जन सुविधा एवं आम आदमी के स्वास्थ्य/चिकित्सा के दृष्टिगत शासकीय चिकित्सालयों में विशेषज्ञों के 1388 पदों तथा चिकित्सा अधिकारियों के 1832 रिक्त पदों की पूर्ति हेतु मांग-पत्र मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग को प्रेषित किया गया है। मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा चयन सूची उपलब्ध कराये जाने उपरांत पदस्थापना की कार्यवाही की जावेगी। पदपूर्ति निरंतर प्रक्रिया होने से समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
नियम विरूद्ध BMO का प्रभार
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
41. ( क्र. 1362 ) सुश्री रामश्री (बहिन रामसिया भारती) राजपूत : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला छतरपुर के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बड़ा मलहरा के खण्ड चिकित्सा अधिकारी डॉ. कृष्ण प्रताप सिंह का MPPSC के आदेश क्रमांक 7274/02/2023 दिनांक 16 अगस्त, 2023 चयन किया गया था, जबकि डॉ. कृष्ण प्रताप सिंह के विरूद्ध Eow में एफ.आई.आर. 102/2022 दर्ज है। (ख) क्या अभ्यर्थी के विरूद्ध एफ.आई.आर. दर्ज होने पर नियुक्ति का प्रावधान है, यदि नहीं, तो डॉ. कृष्ण प्रताप सिंह का पुलिस वेरिफिकेशन किया गया। यदि हाँ, तो उपलब्ध करायें। (ग) सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र बड़ा मलहरा में वरिष्ठ डॉक्टर उपलब्ध होने पर भी, कनिष्ठ डॉ. राम हरिया में पदस्थ होने के बाद भी प्रभारी खण्ड चिकित्सा अधिकारी का प्रभार किस नियम के तहत दिया गया है?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ, जी हाँ। (ख) जी नहीं। थाना प्रभारी द्वारा पुलिस वेरिफिकेशन संबंधी जारी प्रपत्र जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार (ग) स्थानीय स्तर पर पदस्थ वरिष्ठ चिकित्सकों द्वारा खण्ड चिकित्सा अधिकारी का प्रभार लेने से इंकार करने पर प्रा.स्वा.के. रामटोरिया में पदस्थ डॉ. कृष्ण प्रताप सिंह को स्थानीय व्यवस्था अंतर्गत खण्ड चिकित्सा अधिकारी का प्रभार सौंपा गया था। शासकीय स्वास्थ्य केन्द्र का कार्य तात्कालिक रूप से प्रभावित न हो इस कारण दिनांक 06.03.2025 को मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी जिला छतरपुर के आदेश क्रमांक 2025/38547 के तहत् सा.स्वा.के. बड़ामलहरा के खण्ड चिकित्सा अधिकारी का प्रभार डॉ. हरगोबिंद राजपूत को सौंपा गया है।
राशि का गलत आहरण
[स्कूल शिक्षा]
42. ( क्र.
1369 ) सुश्री
रामश्री (बहिन
रामसिया
भारती) राजपूत
: क्या
स्कूल शिक्षा
मंत्री महोदय
यह बताने की कृपा
करेंगे कि (क) क्या
उच्च मा.
शिक्षक को
आहरण संवितरण
के अधिकार
वित्त विभाग
द्वारा अथवा
स्कूल
शिक्षा विभाग
द्वारा
राजपत्रित
श्रेणी दें, II को घोषित
किया गया है
यदि हाँ, तो म.प्र.
शासन द्वारा
जारी किये गये
गजट की प्रति
या आदेश
प्रदान करने
की कृपा करें।
(ख)
म.प्र. शासन
सामान्य
प्रशासन
विभाग के
परिपत्र क्र. F/11-38/96/9/दिनांक
04/11/1996
एवं सामान्य
प्रशासन
विभाग
मंत्रालय
भोपाल के पत्र
क्र. F/11-41/2014/119
दिनांक 14-11-2014 के
द्वारा
कनिष्ट लोक
सेवक के रिक्त
पद का प्रभार
न दिया जाये
उल्लेखित था
किन्तु भिण्ड
जिले में
विकासखण्ड
शिक्षा
अधिकारी लहार
श्री प्रेम
सिंह बघेल विकासखण्ड
शिक्षा
अधिकारी किस
तरह पदस्थ
हैं। (ग) क्या
विकास शिक्षा
अधिकारी मेहगांव
श्री राजवीर
शर्मा उच्च
मा.शिक्षक को
आहरण एवं
संबंधित
संवितरण अधिकार
सहित पदस्थापना
की गई। (घ) क्या
लहार मेहगांव
विकासखण्ड
में प्राचार्य
हायर
सेकेण्डरी
व्याख्याता
आदि लोक सेवक
पदस्थ नहीं
है यदि हाँ, तो
पदांकित लोक
सेवक की सूची
प्रदान करें, नियम
विरूद्ध आदेश
प्रसारित
करने वाले
अघिकारी को दण्डित
किया जावे एवं
कनिष्ठ लोक
सेवक को हटाकर
वरिष्ठ लोक
सेवक को
प्रभार दिया
जावेगा। कब तक
समय-सीमा
बताएं।
स्कूल
शिक्षा
मंत्री ( श्री
उदय प्रताप
सिंह ) : (क) जी
नहीं। म.प्र.
राजपत्र
(असाधारण)
प्राधिकार से
प्रकाशित
दिनांक 30.7.2018 की
अनुसूची 01
अनुसार उच्च
माध्यमिक
शिक्षक को
द्वितीय श्रेणी
मान्य किया
गया है। जानकारी
संलग्न परिशिष्ट-
एक पर है। (ख) विकासखण्ड
शिक्षा
अधिकारी लहार
के पद पर पदस्थ
श्री आर.के.
बांगरे, सहायक
संचालक के
सेवानिवृत्त
होने से विकासखण्ड
लहार अन्तर्गत
कार्यरत
वरिष्ठ लोक
सेवकों
द्वारा बी.ई.ओ.
पद पर कार्य
करने में
असहमति दिये
जाने के कारण
तथा श्री कोमल
सिंह परिहार
प्राचार्य शा.कन्या
उ.मा.वि. लहार
के विरूद्ध
वित्तीय अनियमितता
जांच प्रचलन
में होने से
विकासखण्ड शिक्षा
अधिकारी लहार
के पद पर श्री
प्रेम सिंह
बघेल उच्च
माध्यमिक
शिक्षक
शा.उ.मा.वि. दबोह
(लहार) को
कलेक्टर जिला
भिण्ड के
अनुमोदन उपरांत
आदेश क्र.
स्था/प्रभार/2024/9457
दिनांक 30.9.2024 द्वारा
विकासखण्ड
शिक्षा
अधिकारी लहार
का प्रभार
दिया गया है। (ग) जी
हाँ।
विकासखण्ड
मेहगाँव
अंतर्गत
कार्यरत
वरिष्ठ लोक
सेवकों
द्वारा बी.ई.ओ.
पद पर कार्य
करने में
असहमति
प्रदान करने
के उपरांत
विकासखण्ड शिक्षा
अधिकारी
मेहगांव के पद
पर श्री
राजवीर शर्मा
उ.मा.शि., शा.उ.मा.वि.
वरहद को
विकासखण्ड
शिक्षा
अधिकारी का
प्रभार एवं
आहरण एवं
संवितरण
अधिकार दिये गये
हैं। (घ) पदांकित
लोक सेवकों की
सूची संलग्न
परिशिष्ट-
दो पर है।
उत्तरांश 'ख' के
प्रकाश में
शेषांश का
प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता है।
जल संसाधन विभाग की परियोजनाओं की जानकारी
[जल संसाधन]
43. ( क्र. 1435 ) श्री राजेन्द्र भारती : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2020-2021 से वर्ष 2024-2025 तक विभाग द्वारा कितनी-कितनी सिंचाई परियोजना से संबंधित कितनी-कितनी लागत राशि के टेन्डर आमंत्रित किये गये है? कृपया वर्षवार, परियोजनावार अलग-अलग जानकारी दें। (ख) क्या उक्त परियोजनाओं में विभाग के नियमानुसार स्वीकृत कार्य एजेंसियों को एडवांस राशि दिये जाने का प्रावधान है? यदि हाँ, तो कौन-कौन सी सिंचाई परियोजनाओं की कार्य एजेंसियों (कंपनियों) को कितनी-कितनी अग्रिम राशि का भुगतान किया गया है तथा उक्त अग्रिम राशि के विरूद्ध उक्त कंपनियों द्वारा कितना-कितना कार्य किया गया है? कृपया वर्षवार, परियोजनावार अलग-अलग विवरण दें। क्या विभाग में ई-टेण्डरिंग घोटाला हुआ है? यदि हाँ, तो कितनी राशि का हुआ है? कृपया विस्तृत विवरण देते हुए बतायें कि जांच में कौन-कौन दोषी पाये गये तथा उनके विरूद्ध क्या कार्यवाही की गई है? जानकारी दें। (ग) क्या उक्त परियोजनाओं में दतिया जिले की मां रतनगढ़ बहुउद्देशीय परियोजना तथा रामसागर तालाब की योजना विभाग द्वारा स्वीकृत की गई थी? यदि हाँ, तो उक्त परियोजना की कितनी-कितनी लागत है तथा कौन-कौन सी कंपनियों को ठेका दिया गया है और कितनी-कितनी राशि अग्रिम रूप से दी गई है तथा कितनी-कितनी राशि का निर्माण कार्य किया गया है? कृपया भुगतान राशि के बिल वाउचर सहित कैशबुक, एमबी बुक और डीपीआर उपलब्ध करायें। (घ) दतिया जिला में बुन्देलखण्ड पैकेज के अंतर्गत जल संसाधन विभाग को कितनी राशि आवंटन प्राप्त हुई थी तथा उक्त राशि से कौन-कौन से कार्य किये गये है? कृपया भौतिक सत्यापन सहित व्यय की गई राशि के बिल वाउचर सहित कैशबुक, एमबी बुक और डीपीआर उपलब्ध करायें।
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
पटवारी राजस्व निरीक्षकों व सहायक अधीक्षक की पदोन्नति
[राजस्व]
44. ( क्र. 1471 ) श्री आरिफ मसूद : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश शासन राजस्व विभाग में पटवारियों से राजस्व निरीक्षकों तथा राजस्व निरीक्षकों से सहायक अधीक्षक भू-अभिलेख/नायब तहसीलदारों के पद पर प्रमोशन देने संबंधी विभागीय नियमों/ आदेशों की प्रति उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में विभाग में पदोन्नति संबंधी डी.पी.सी. करने के क्या नियम है और पिछले 10 वर्षों में कब-कब डी.पी.सी. हुई जानकारी उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में क्या यह कहना सही है कि वर्ष 1994-1995 में म.प्र. शासन राजस्व विभाग द्वारा स्पोर्टस कोटे के अंतर्गत 09 खिलाडि़यों को उत्कृष्ठ खिलाड़ी घोषित कर राजस्व निरीक्षकों के पद पर पदस्थ किया गया था यदि हाँ, तो उक्त राजस्व निरीक्षकों को कब-कब पदोन्नत किया गया जानकारी उपलब्ध करावें। (घ) क्या उक्त राजस्व निरीक्षकों के प्रमोशन में शासन द्वारा जारी नियमों का उल्लंघन कर 22 वर्ष तक एक ही पद पर पदस्थ रखा गया यदि हाँ, तो उक्त संबंध में संबंधित अधिकारियों के विरूद्ध क्या कार्यवाही की जावेगी तथा राजस्व निरीक्षकों को कब तक अगला प्रमोशन दिया जाएगा जानकारी उपलब्ध करावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। माननीय उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा W.P.No. 1942/2011 में पारित निर्णय दिनांक 30.04.2016 से म.प्र. पदोन्नति नियम 2002 को निरस्त किया गया (ख) पटवारी से राजस्व निरीक्षक के पद पर पदोन्नति हेतु वर्ष 2016 में दिनांक 08.01.2016 को डी.पी.सी. आयोजित की गई थी। पदोन्नति संबंधी डी.पी.सी. करने के नियम पदोन्नति नियम-2002 के अनुसार राजस्व निरीक्षक से सहायक अधीक्षक भू-अभिलेख के पद पर पदोन्नति हेतु वर्ष 2015 में दिनांक 29.09.2015 को डी.पी.सी. शासन स्तर पर आयोजित की गई थी। (ग) जी हाँ, वर्ष 1994 में स्पोर्टस कोटे के अंतर्गत चयनित राजस्व निरीक्षक को वर्ष 2015 में सहायक अधीक्षक भू-अभिलेख के पद पर पदोन्नति किया गया। वर्ष 1995 में स्पोर्टस कोटे के अंतर्गत चयनित राजस्व निरीक्षक पदोन्नति हेतु विचार क्षेत्र में नहीं आने के कारण पदोन्नत नहीं किये जा सके है। (घ) वर्ष 2014-2015 में राजस्व निरीक्षक की दिनांक 01.04.2013 की वरिष्ठता सूची के क्रम में वर्गवार रिक्त पदों के आधार पर राजस्व निरीक्षक से सहायक अधीक्षक भू-अभिलेख के पद पर पदोन्नति की गई है। वर्ष 1995 में स्पोर्टस कोटे से चयनित राजस्व निरीक्षक विचार क्षेत्र में नहीं आने के कारण वर्ष 2014-2015 में पदोन्नत नहीं हुए है। वर्ष 2016 से पदोन्नति प्रकरण माननीय न्यायालय में विचाराधीन होने के कारण कोई पदोन्नति समिति की बैठक आयोजित नहीं की गई है।
आउटसोर्स से रखे गए कम्प्यूटर ऑपरेटरों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
45. ( क्र.
1502 ) श्री
अरूण भीमावद : क्या
स्कूल शिक्षा
मंत्री महोदय
यह बताने की कृपा
करेंगे कि (क) म.प्र.
में स्कूल
शिक्षा विभाग
अंतर्गत कम्प्यूटर
ऑपरेटरों को
कितने वर्षों
से आउटसोर्स पर
रखा जा रहा है? कार्यरत
आउटसोर्स
कर्मियों का
वेतन भुगतान प्रतिमाह
किया जा रहा
है तथा कितना
प्रतिमाह किया
जाता है? उसका विवरण
संबंधित
ऑपरेटरों को
अवगत कराया जाता
है?
(ख) यदि
नहीं,
तो क्या
कारण है कि
आउटसोर्स कम्प्यूटर
ऑपरेटरों पर
रखे गए
कर्मियों को
विषेष अनुदान
राशि देने का
प्रावधान है? (ग) यदि
नहीं है तो
क्यों नहीं
तथा कब तक
प्रस्तावित
की जावेगी? (घ) प्रदेश
में शिक्षा
विभाग के अधिन
कार्यरत डाटा
एन्ट्री
ऑपरेटर सहायक
ग्रेड-3 (आउटसोर्स)
को अनुभव के
आधार पर विभाग
में नियमितीकरण
की योजना है
या नहीं? (ड.)
मध्यप्रदेश
में 01
अप्रेल 2024 से न्यूनतम
मजदूरी दर
पुनरीक्षित
की गई है? जिसका लाभ
आउटसोर्स
कर्मचारियों
को कब तक मिलेगा? 2024
से बड़े हुए
वेतन के एरियर
की राशि
मिलेगी या नहीं?
स्कूल
शिक्षा
मंत्री ( श्री
उदय प्रताप
सिंह ) : (क) स्कूल
शिक्षा विभाग
में विगत तीन
वर्षों से कम्प्यूटर
ऑपरेटरों को
शालाओं में
आउटसोर्स पर
रखा गया है जी
हाँ, शासन
द्वारा
निर्धारित
कलेक्टर दर
अनुसार एजेंसी
द्वारा किया
जाता है। (ख) संबंधित
एजेंसी
द्वारा
अनुबंध के
आधार पर कार्यवाही
की जाती है। (ग) उत्तरांश
(ख) के प्रकाश
में प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता। (घ) ऐसी
कोई योजना
विचाराधीन
नहीं है। (ड.) म.प्र.
शासन श्रम
विभाग द्वारा
समय-समय पर
निर्देश जारी
किये जाते
हैं।
तदानुसार
प्राप्त निर्देशों
का पूर्णतः
पालन किया
जाता है।
हाईस्कूल विद्यालयों के भवन निर्माण की स्वीकृति
[स्कूल शिक्षा]
46. ( क्र. 1503 ) श्री अरूण भीमावद : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शाजापुर जिले में कितने हाईस्कूल विद्यालय संचालित है? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार कितने हाईस्कूल के भवन है अथवा नहीं है? क्या तिलावद गोविन्द, निपानिया डाबी, बिकलाखेड़ी आदि के भवन निर्माण प्रक्रिया में है? (ग) यदि नहीं है तो क्यों नहीं तथा कब तक हाईस्कूलों के भवन निर्माण स्वीकृत होंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन जिला अंतर्गत शिक्षा विभाग अंतर्गत 50 शासकीय हाईस्कूल संचालित है। (ख) शासकीय माध्यमिक शालाओं के उन्नयन उपरांत माध्यमिक शालाओं के भवन ही हाईस्कूल भवन है, अतः शेष उद्भूत नहीं होता। जी नहीं। (ग) विद्यार्थी नामांकन के अनुसार अतिरिक्त आवश्यकता होने पर उपलब्ध बजट अनुसार अधोसंरचना सुदृढ़ीकरण कार्य किया जाता है। अधोसरचना सुदृढ़ीकरण कार्य बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
सेवा भर्ती नियम की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
47. ( क्र. 1513 ) श्री फूलसिंह बरैया : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण (राजपत्रित) सेवा भर्ती नियम 2022 के तहत विशेषज्ञ संवर्ग से आगामी पदों पर चयन हेतु शासन के पत्र क्रमांक/1जी/विज्ञप्त/ सेल-6/2023/232 भोपाल दिनांक 07/03/2023 से लोक स्वास्थ्य प्रबंधन संवर्ग में उल्लेखित पदों के लिए चयन हेतु विशेषज्ञों की वरिष्ठता सूची दिनांक 01/04/2021 की स्थिति में विकल्प मांगे गए थे लेकिन विभाग द्वारा दिनांक 01/04/2022 की वरिष्ठता सूची के आधार पर चयन प्रक्रिया क्यों संपादित की गई जिसमें विकल्प दोनों वर्ष की वरिष्ठता सूची के आधार पर पृथक एवं परिवर्तित हो जाते हैं। ऐसी गलत प्रक्रिया क्यों अपनाई गई स्पष्ट विवरण दें तथा गलत प्रक्रिया करने वालों के विरूद्ध क्या कार्रवाई और कब तक की जाएगी? स्पष्ट विवरण दें। (ख) लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण (राजपत्रित) सेवा भर्ती नियम 2022 के अनुसार भारत के अनुच्छेद 335 में संविधान के 82 में संशोधन के प्रावधान अनुसार अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति के लोक सेवकों के लिए आरक्षण नियमों के प्रावधानों का पालन किया गया हैं जिसमें उच्च पदों के चयन हेतु मूल्यांकन मानकों को कम करने का प्रावधान है। यदि नहीं, तो क्या संविधान के 82वें संशोधन के प्रावधानों को इस नियम और चयन प्रक्रिया में आरक्षण को खत्म कर दिया है। यदि हाँ, तो गैर संवैधानिक कार्य करने वाले जिम्मेदार अधिकारियों या संबंधित के विरूद्ध क्या? कब तक कार्रवाई की जाएगी विस्तृत जानकारी दें। (ग) लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग मंत्रालय के आदेश क्रमांक/ एफ980/495/2023/सत्रह/मेडि-एक भोपाल दिनांक 04/07/2023 तथा अविशेषज्ञ संपर्क से लोक स्वास्थ्य प्रबंधन संवर्ग में चयन हेतु आदेश जारी किए गए थे जिसमें आरक्षण नियम 1994 के प्रावधान का पालन करने हेतु प्रमाणिक अंकित क्यों नहीं किया गया हैं? क्या इन आदेशों में आरक्षण खत्म कर दिया गया हैं क्यों? स्पष्ट विवरण दें तथा दोषियों के विरूद्ध कब तक क्या कार्रवाई की जाएगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा (राजपत्रित) सेवा भर्ती नियम 2022 के प्रावधानों अनुसार विकल्प प्राप्त करने एवं चयन किए जाने की कार्यवाही विभिन्न चरणों में उपलब्ध अंतिम वरिष्ठता सूची के आधार पर नियमानुसार संपादित की गई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा (राजपत्रित) सेवा भर्ती नियम 2022 के प्रावधानों के अनुरूप चयन की कार्यवाही की गई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा (राजपत्रित) सेवा भर्ती नियम 2022 के प्रावधानों के अनुरूप चयन की कार्यवाही की गई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
फर्जी अल्पसंख्यक संस्थाओं पर एफ.आई.आर.
[स्कूल शिक्षा]
48. ( क्र. 1542 ) डॉ. हिरालाल अलावा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा प्रश्न-क्रमांक 3057 दिनांक-10.07.2024 के प्रश्नांश (घ) के उत्तर में विभाग के द्वारा जानकारी दी गई कि अल्पसंख्यक विद्यार्थियों के अनुपात के संबंध में कोई मापदंड स्थापित न होने से प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता? (ख) क्या उक्त प्रश्न के प्रश्नांश (क) के परिशिष्ट 4 के अनुसार विगत 04 वर्षों में किसी भी स्कूल में न्यूनतम 25 प्रतिशत अल्पसंख्यक छात्र प्रवेशित नहीं पाए गए? (ग) यदि हाँ, तो उक्त प्रश्न के प्रश्नांश (क) के परिशिष्ट 8 के पृष्ठ-क्रमांक 5 में पात्रता एवं शर्तें 19.3 में अल्पसंख्यक छात्र संख्या 25 प्रतिशत से कम नहीं होगी, स्पष्ट उल्लेखित है? (घ) यदि हाँ, तो क्या जिला कलेक्टर इस मामले में भी दंडात्मक कार्यवाही करेंगे या नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) संदर्भित विधानसभा प्रश्न के परिशिष्ट - 4 के क्रमांक 3 पर अंकित क्राईस्ट चर्च को-एड में केवल वर्ष 2021-22 में ही प्रतिशत अल्पसंख्यक विघार्थियों की संख्या का उल्लेख है अन्य 03 वर्षों में नहीं है। शेष 06 संस्था में किसी भी वर्ष 25 प्रतिशत अल्पसंख्यक छात्र प्रवेशित नहीं पाये गये। (ग) संदर्भित प्रश्न के उत्तर में परिशिष्ट - 8 न होने के कारण शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश ''ग'' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
बायोमेडिकल रिसर्च की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
49. ( क्र. 1548 ) डॉ. हिरालाल अलावा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या नेशनल मेडिकल कमिशन की टीईक्यू नियमावली 2022 अनुसार किसी भी मेडिकल कॉलेज में सह-प्राध्यापक पद पर नियुक्ति हेतु नेशनल मेडिकल कमिशन द्वारा निर्दिष्ट संस्थानों से बायोमेडिकल रिसर्च (BCBR/BMR) में बुनियादी पाठ्यक्रम पूरा होना चाहिए प्रकाशित है? (ख) गांधी चिकित्सा महाविद्यालय भोपाल द्वारा जारी विज्ञप्ति क्र. 10887/एम.सी./4/राज/2023 दिनांक 13/03/2023 में सह-प्राध्यापक, दंत विभाग (मेक्सिलोफेशियल पृथक यूनिट) में आवेदन करने की अंतिम तिथि (20/03/2023) तक– (अ) कुल प्राप्त आवेदनों की संख्या व आवेदक चिकित्सकों के नाम तालिकावार उपलब्ध करवाएं। (ग) आवेदक चिकित्सक जिनके पास अंतिम तिथि तक नेशनल मेडिकल कमिशन द्वारा अनिवार्य बायोमेडिकल (BCBR/BMR) रिसर्च प्रमाण पत्र था उनके प्रमाण पत्र की छायाप्रति उपलब्ध कराएं। (घ) क्या कोई ऐसा आवेदक चिकित्सक था जिसके पास आवेदन जमा करने की अंतिम तिथि (20/03/2023) तक आवेदन पत्र में उपरोक्त अनिवार्य बायोमेडिकल (BCBR/BMR) रिसर्च प्रमाण पत्र संलग्न नहीं किया गया था? आवेदक चिकित्सक का नाम प्रस्तुत करने का कष्ट करें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख)
क्र. |
आवेदक का नाम |
प्राप्त आवेदनों की संख्या |
|
डॉ. अनिमेष बरेडिया |
05 |
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डॉ. रोहित शर्मा |
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डॉ. नमन अवस्थी |
|
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डॉ. पुनित सिंह दिखीत |
|
|
डॉ. योगेश शर्मा |
(ग) डॉ. नमन अवस्थी जिनके द्वारा अंतिम तिथि तक (BCBR/BMR) प्रमाण पत्र दिया गया संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (घ) आवेदक जिनके द्वारा अंतिम तिथि तक (20.03.2023) तक (BCBR/BMR) प्रमाण पत्र संलग्न नहीं किया गया।
क्र. |
आवेदक का नाम |
प्राप्त आवेदनों की संख्या |
|
डॉ. अनिमेष बरेडिया |
04 |
|
डॉ. रोहित शर्मा |
|
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डॉ. पुनित सिंह दिखीत |
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|
डॉ. योगेश शर्मा |
दुधाखेडी माताजी को (माता लोक) बनाया जाना
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
50. ( क्र. 1561 ) श्री चन्दरसिंह सिसौदिया : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भानपुरा जिला मन्दसौर स्थित दुधाखेडी माता आरोग्य धाम जहां प्रतिदिन लगभग दस हजार दर्शनार्थी एवं नवरात्रि में प्रतिदिन लगभग एक लाख से अधिक श्रद्धालु दर्शनार्थ आते हैं, सिंहस्थ में और अधिक दर्शनार्थी यहां आने की संभावना है? क्या सरकार इस प्रसिद्ध धार्मिक स्थल को '' महाकाल लोक '' समान '' माता लोक '' बनाने में आश्यक स्वीकृति एवं बजट प्रावधान करेगी? (ख) यदि हाँ, तो सिंहस्थ पूर्व इस हेतु स्वीकृति प्रदान कर माता लोक बनायेगी? यदि नहीं, तो इस प्रसिद्ध को स्वीकृति क्यों नहीं?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। विभाग अन्तर्गत ''लोक'' बनाए जाने संबंधी प्रावधान नहीं है। शेष प्रश्न उद्भूत नहीं होता। (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उद्भूत नहीं होता।
पार्वती-कालीसिंध-चम्बल लिंक परियोजना
[जल संसाधन]
51. ( क्र. 1565 ) श्री देवेन्द्र कुमार जैन : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पार्वती-कालीसिंध-चम्बल लिंक परियोजना में (श्रीमंत माधवराव सिंधिया सिंचाई परियोजना के अंतर्गत) शिवपुरी जिले में किन-किन बांधों से किन-किन विकासखण्डों के कौन-कौन से ग्रामों में कितनी-कितनी कृषि भूमि के रकबे की सिंचाई होगी? ग्रामवार, विकासखण्डवार सूची प्रदान करें। (ख) प्रश्नांश (क) के अनुसार उक्त सिंचाई परियोजना के किस-किस बांध से पोहरी विकासखण्ड के कौन-कौन से ग्राम पूर्णतः एवं कौन-कौन से ग्राम आंशिक रूप से डूब क्षेत्र में आ रहे हैं? स्पष्ट सूची उपलब्ध करावें। डूब क्षेत्र में आने वाली कृषि भूमि एवं ग्रामीणों के मकानों का मुआवजा किस-किस दर से दिया जाना प्रस्तावित है?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) पार्वती-कालीसिंध-चम्बल लिंक परियोजना में श्रीमंत माधवराव सिंधिया सिंचाई परियोजना के अंतर्गत शिवपुरी जिले में सोनपुर, कटीला-पवा एवं नैनागढ़ वृहद सिंचाई परियोजनाओं से पोहरी, शिवपुरी, बदरवास एवं कोलारस विकासखंड के ग्रामों में लगभग 1,35,743 हे. क्षेत्र में सिंचाई सुविधा प्रस्तावित की जाना प्रतिवेदित है। परियोजना की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की गई है, निविदा उपरांत विस्तृत सर्वेक्षण एवं रूपांकन (Design) के स्वीकृति के पश्चात ही कमाण्ड क्षेत्र के ग्रामों एवं क्षेत्रफल का निर्धारण अंतिम किया जा सकेगा प्रतिवेदित है। अत: वर्तमान में सूची उपलब्ध कराया जाना संभव नहीं है। (ख) उत्तरांश (क) के अनुसार निविदा उपरांत विस्तृत सर्वेक्षण एवं रूपांकन (Design) के स्वीकृति के पश्चात ही डूब से प्रभावित होने वाले पूर्ण एवं आंशिक ग्रामों के निश्चित क्षेत्रफल की जानकारी संकलित की जाना संभव होगा। राजस्व विभाग की गाईड लाईन के अनुसार मुआवजा निर्धारण किया जा सकेगा।
ग्राम उत्तमपुरा तहसील-टीकमगढ़ की शासकीय भूमि खुर्द-बुर्द की जाना
[राजस्व]
52. ( क्र. 1579 ) श्री यादवेन्द्र सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या ग्राम उत्तमपुरा की भूमि खसरा नं. 87/2/1 एवं खसरा नं.87/2/2 शासकीय है, पट्टे पर संजय जैन एवं अरविंद जैन को 5-5 एकड़ दी गई थी। जबकि पट्टेदार न तो उस ग्राम का निवासी है और न ही कृषक की परिभाषा में आता है? (ख) क्या कलेक्टर टीकमगढ़ ने अपने प्र.क्र. 7/अ-21/ 20-21 में पारित आदेश दिनांक 17.02.2021 पटवारी प्रतिवेदन के आधार पर विक्रय की स्वीकृति दी है? पटवारी द्वारा गलत प्रतिवेदन देने के कारण पटवारी के विरूद्ध कार्यवाही नहीं की गई क्यों? (ग) क्या क्रेतागण उच्च भू-माफिया है जिनके विरूद्ध अवैध कॉलोनाईजर एवं शासकीय भूमि खुर्द-बुर्द के अनेकों प्रकरण लंबित है? (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) में वर्णित तथ्यों से यह सिद्ध नहीं होता कि पटवारी एवं कलेक्टर भी भू-माफियाओं को सहयोग देकर गैर-कानूनी कार्य को अमलीजामा पहना रहे है? ऐसा क्यों?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी नहीं। जी हाँ। पट्टेदार के निवासी के संबंध में पूर्व में वरिष्ठ न्यायालय द्वारा जांच की गई जिसके अनुसार न्यायालय अपर कलेक्टर के द्वारा प्रकरण क्रमांक 34/स्व निगरानी/2002-03 एवं 33/स्व निगरानी/2002-03 में अनुविभागीय अधिकारी टीकमगढ़ के प्रस्ताव अनुसार संजय कुमार तनय कुंदनलाल जैन एवं अरविंद तनय कुंदनलाल जैन को टीकमगढ़ का निवासी मानते हुए तहसीलदार टीकमगढ़ द्वारा जारी पट्टों को निरस्त किया गया। न्यायालय अपर आयुक्त सागर संभाग द्वारा पुनरीक्षण 666/अ-19/2002-03 एवं 665/अ-19/ 2002-03 में अपर कलेक्टर टीकमगढ़ के आदेश को यथावत रखा गया है एवं पुनरीक्षणकर्ताओं अरविंद तनय कुंदनलाल जैन एवं संजय तनय कुंदनलाल जैन को टीकमगढ़ का निवासी होना अपने आदेश में लेख किया गया है। न्यायालय राजस्व मंडल ग्वालियर द्वारा प्रकरण 579-दो-06 एवं 580-दो-06 के द्वारा उपरोक्त न्यायालय अपर कलेक्टर टीकमगढ़ द्वारा पारित आदेश एवं न्यायालय अपर आयुक्त सागर द्वारा पारित आदेश को निरस्त किया गया है। (ख) कलेक्टर टीकमगढ़ न्यायालय के प्रकरण क्रमांक 07/अ-21/2020-21 आदेश दिनांक 17.02.2021 द्वारा आवेदक द्वारा प्रस्तुत आवेदन पत्र पर नियमानुसार अधीनस्थ न्यायालय तहसीलदार टीकमगढ़ के प्रकरण क्रमांक 951/ब-121/2020-21 में आदेश दिनांक 06.02.2021 एवं न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी टीकमगढ़ की उक्त प्रकरण में अनुशंसा दिनांक 12.02.2021 में विधिवत विस्तृत जांच रिपोर्टों के आधार पर शासन द्वारा विहित प्रक्रिया अनुसार ही भूमि विक्रय की अनुमति जारी की गई। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) भू-माफियाओं के संबंध में शिकायत प्राप्त होने पर जांच की जा रही हैं। वर्तमान में जांच प्रचलित होने से शेष जानकारी निरंक है। (घ) प्रश्नांश 'ख' में उल्लेखित प्रकरण में आवेदक द्वारा प्रस्तुत आवेदन पत्र पर नियमानुसार अधीनस्थ न्यायालय तहसीलदार टीकमगढ़ एवं न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी टीकमगढ़ से विधिवत विस्तृत जांच रिपोर्टों पर शासन द्वारा विहित प्रक्रिया अनुसार ही भूमि विक्रय की अनुमति जारी की गई। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
रेफर रोगियों की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
53. ( क्र. 1581 ) श्री देवेन्द्र कुमार जैन : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) श्रीमंत राजमाता विजयाराजे सिंधिया शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय (मेडीकल कॉलेज) शिवपुरी से विगत 02 वर्षों में कितने रोगी ग्वालियर अथवा अन्यत्र रेफर किये गए? रेफर किये गये मरीज किन बीमारियों से पीडि़त थे तथा वे किस विभाग से संबंधित थे? विभागवार सूची सहित जानकारी दें? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार रेफर किये गए रोगियों में से कितने रोगी महाविद्यालय में आवश्यक उपकरण/मशीनें उपलब्ध नहीं होने के कारण अथवा महाविद्यालय में विशेषज्ञ चिकित्सक पदस्थ न होने के कारण रेफर किये गये थे? यदि रोगी उपकरणों के अभाव में बाहर रेफर किये गए थे? तो ऐसे किन-किन आवश्यक उपकरण/मशीनों की मेडीकल कॉलेज शिवपुरी को आवश्यकता है तथा वे कब तक उपलब्ध होंगे? (ग) मेडीकल कॉलेज शिवपुरी में किन-किन विभागों में विशेषज्ञ चिकित्सकों के कितने-कितने पद स्वीकृत हैं? उनमें कितने पद कब से रिक्त हैं?व क्यों? रिक्त पदों को भरने हेतु अब तक क्या कार्यवाही की गई? रिक्त पद कब तक भरे जायेंगे?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) चिकित्सा महाविद्यालय, शिवपुरी से विगत 2 वर्षों में रेफर किए रोगियों की विभागवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-1 अनुसार। (ख) उत्तरांश "क" अनुसार आवश्यक अनुपलब्ध उपकरणों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-2 अनुसार। उपकरणों का क्रय बजट की उपलब्धता के अनुसार किया जाता है, समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) स्वीकृत एवं रिक्त पदों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-3 अनुसार। रिक्त पदों की पूर्ति हेतु समय-समय पर विज्ञापन जारी किये जाते है, पदों की पूर्ति किया जाना एक निरंतर प्रक्रिया है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
कृषकों को सिंचाई हेतु पर्याप्त पानी की उपलब्धता
[जल संसाधन]
54. ( क्र. 1643 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) तवा परियोजना अंतर्गत हरदा जिले की वाटर कोष एवं सिंचाई नालियों को ऊपरी छोर को दबंग लोगों द्वारा अवरूद्ध कर दिया जाता है, जिसके कारण नीचली छोर के किसानों को सिंचाई हेतु पानी नहीं मिल पाता है। इस प्रकार की कुल कितनी शिकायतें विभाग को प्रश्न दिनांक तक प्राप्त हुई है व प्राप्त शिकायतों के निराकरण हेतु क्या कार्यवाही की गई एवं विभाग द्वारा व्यवस्था को दुरूस्त करने के क्या प्रयास किए जा रहे? प्राप्त शिकायतवार विस्तृत जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) तवा परियोजना की अधिकांश उपशाखाओं में गेट नहीं होने से दबंग लोगों द्वारा मनमाने तरीके से ओवर साईज कुलावे एवं खुली नालियों द्वारा पानी लेकर व्यर्थ बर्बाद किया जाता है। इस व्यवस्था को सुधारने हेतु क्या प्रयास किए जा रहे है? (ग) ग्रीष्म कालीन मूंग फसल हेतु तवा डेम से पूरा पानी कमांड क्षेत्र हेतु छोड़ा जा रहा है परन्तु रकबा कम क्यों ऐलान किया जाता है? (घ) मूंग फसल हेतु नीचले छोर के किसानों को पर्याप्त पानी मिले इसके लिए विभाग द्वारा क्या व्यवस्था की जावेगी?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी नहीं। नहरों के निचले छोर के किसानों को पानी नहीं मिलने के संबंध में रबी सिंचाई 2025 के दौरान 20 शिकायतें प्राप्त होने के उपरांत शिकायतों का निराकरण किसानों की आपसी सहमति से कर, निचली छोर तक पानी सिंचाई हेतु उपलब्ध कराया जाना प्रतिवेदित है। विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी नहीं। मैदानी अमले द्वारा आवश्यकतानुसार पुलिस की सहायता लिया जाकर व्यवस्था बनाई जाना प्रतिवेदित है। (ग) रबी सिंचाई उपरांत तवा डेम में पानी की उपलब्धता अनुसार तथा जिला जल उपयोगिता समिति की बैठक में लिए गये निर्णय अनुसार ग्रीष्मकालीन मूंग हेतु रकबा का एलान किया जाना प्रतिवेदित है। (घ) जिला जल उपयोगिता समिति की बैठक में निर्णय अनुसार ग्रीष्मकालीन मूंग हेतु एलान रकबा अनुसार विभाग द्वारा ओसराबंदी एवं सतत् निगरानी किया जाकर किसानों को निचले छोर तक पर्याप्त पानी पहुंचाने हेतु प्रयास किया जाना प्रतिवेदित है।
शासकीय भूमि को अतिक्रमण मुक्त किया जाना
[राजस्व]
55. ( क्र. 1648 ) श्री इंजीनियर हरिबाबू राय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता द्वारा पूर्व में भी शंकरपुर मगरदा टोरिया के चारों तरफ शासकीय भूमि पर से अतिक्रमण हटाने हेतु विधानसभा में याचिका लगायी थी, उस पर अभी तक कोई कार्यवाही नहीं की गई। क्या प्रशासनिक अधिकारियों को इस अतिक्रमण की जानकारी है या नहीं। जानकारी दें। (ख) क्या उस शासकीय भूमि पर रसूखदार खेती कर रहे, भूखण्ड बेच रहे हैं, अवैध कब्जा पैसा लेकर करवा रहे। जानकारी दें। (ग) प्रश्नांश (क) वर्णित शासकीय भूमि को कब तक अतिक्रमण मुक्त करा लिया जायेगा?
राजस्व
मंत्री ( श्री
करण सिंह
वर्मा ) : (क) तहसील
अशोकनगर
ग्राम
शंकरपुर में
मगरधा टोरिया
स्थित भूमि
सर्वे क्र. 155
पहाड़ी पर न्यायालयीन
प्र.क्र. 117/3-68/17-18, प्र.क्र.118/3-68/17-18, प्र.क्र
113/अ-68/17-18
के आदेश के
पालन में
पूर्व में
पक्का
अतिक्रमण
हटाया गया था।
दिनांक 05 मई 2022
को भी शंकरपुर
मगरदा की
शासकीय भूमि
से अतिक्रमण
हटाने की
कार्यवाही की
गई थी। दिनांक
06
मई 2022
की दैनिक
भास्कर की
समाचार पत्र
की छायाप्रति संलग्न
परिशिष्ट अनुसार
है।
वर्तमान में
ग्राम
शंकरपुर
स्थित शासकीय
भूमि पर
अतिक्रमण के
संबंध में
न्यायालय तहसीलदार
तहसील
अशोकनगर में
प्रकरण
क्रमांक 0074/1-68/24-25
एवं प्र.क्र. 0075/अ-68/24-25
प्रचलित है। (ख) उत्तरांश
'क' के
प्रकाश में
संहिता के
प्रावधानों
के अनुसरण में
कार्यवाही की
जा रही है। (ग) उत्तरांश
'क' के
प्रकाश में न्यायालयीन
प्रकरण होने
से समय-सीमा
बताया जाना
संभव नहीं है।
परिशिष्ट
- "छप्पन"
शासकीय भूमि पर अतिक्रमण
[राजस्व]
56. ( क्र. 1649 ) श्री इंजीनियर हरिबाबू राय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ग्राम शंकरपुर ग्राम पंचायत मोहरी राय में कितनी शासकीय भूमि राजस्व रिकार्ड में अंकित हैं, सर्वे क्रमांक सहित रकबा की जानकारी देने की कृपा करें। इस शासकीय भूमि के कौन-कौन से सर्वे क्रमांक पर कितने-कितने रकबे पर किन-किन व्यक्तियों द्वारा अतिक्रमण कर खेती की जा रही है। किन-किन व्यक्तियों ने कौन-कौन से सर्वे क्रमांक की भूमि पर कितने-कितने रकबे में घर बना लिए हैं। कृपया सूचीबद्ध जानकारी देने की कृपा करें। (ख) इन अतिक्रमणकारियों का अतिक्रमण क्यों नहीं हटाया गया है, जबकि समाचार पत्रों द्वारा, सामाजिक व्यक्तियों द्वारा प्रश्नकर्ता द्वारा भी, पत्रकारों द्वारा न्यूज चैनलों के माध्यम से बार-बार अतिक्रमण हटाने को कहा जा रहा हैं। कब तक शासकीय भूमि से अतिक्रमण हटवाया जायेगा, कृपया समय-सीमा बताएं।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) ग्राम शंकरपुर ग्राम पंचायत मोहरी राय में कुल किता 100 कुल रकवा 63.703 हे. शासकीय भूमि राजस्व रिकार्ड में अंकित है। सर्वे क्रमांक सहित रकबा की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'अ'अनुसार। इस शासकीय भूमि के सर्वे नं. 143/1 रकबा 2.000 हे., 143/2 रकवा 1.000 हे. 155/1/6 रकवा 0.418 हे. भूमि पर 03 अतिक्रामक लल्लू, लक्ष्मीनारायण, धीरज सिंह पुत्र इमरत सिंह लोधी द्वारा अतिक्रमण कर खेती की जा रही है। 14 व्यक्तियों द्वारा भूमि सर्वे क्र. 155/1/8 रकवा 0.209 हे. में से 0.050 हे. रकवे पर अस्थाई (झोपड़ी) घर बनाए हैं। सूचीबद्ध जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'ब'अनुसार। (ख) अतिक्रमणकारियों का अतिक्रमण पूर्व में दिनांक 05/05/2022 को हटाया गया था। समाचार पत्र दैनिक भास्कर की दिनांक 06/05/2022 की छायाप्रति जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'स'अनुसार। उपरोक्त अतिक्रमणकारियों का वर्तमान अतिक्रमण हटाए जाने हेतु न्यायालय तहसीलदार तहसील अशोकनगर में प्र.क्र. 0074/1-68/24-25 एवं प्र.क्र. 0075/3-68/24-25 दर्ज कर अतिक्रमण हटाये जाने की कार्यवाही की जा रही है। न्यायालयीन कार्यवाही पूर्ण होने पर विधि अनुसार अतिक्रमण हटाया जायेगा।
ग्राम कोटवार की नियुक्ति
[राजस्व]
57. ( क्र. 1656 ) डॉ. रामकिशोर दोगने : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या आयुक्त द्वारा प्रकरण क्रमांक 0103 अपील वर्ष 2021-22 आदेश दिनांक 29/06/2022 में ग्राम कोटवार की नियुक्ति के संबंध में दिए गए निर्देश के बाद भी तहसीलदार शाहपुर द्वारा प्रकरण क्रमांक 0001/अ-56 वर्ष 2024-25 मौजा तेन्दूखेड़ा में कोटवार की नियुक्ति का आदेश पारित कर दिया है? (ख) आयुक्त ने दिनांक 29/06/2022 को क्या आदेश दिया एवं तहसीलदार ने दिनांक 14/08/2024 का क्या आदेश दिया? पृथक-पृथक जानकारी उपलब्ध करावे। (ग) ग्राम सभा की बैठक दिनांक 30/11/2022 में किसको ग्राम कोटवार बनाने का प्रस्ताव लिया गया? ग्राम सभा के समक्ष किस-किस ने कोटवार पद हेतु आवेदन दिया? तहसीलदार द्वारा अधिसूचित क्षेत्र की ग्राम सभा के प्रस्ताव को अमान्य कर किसी अन्य को कोटवार बनाने का क्या कारण रहा है? स्पष्ट करे। (घ) आयुक्त नर्मदापुरम एवं कलेक्टर बैतूल ग्राम सभा के प्रस्ताव को स्वीकार कर कोटवार की नियुक्ति के संबंध में कब तक संशोधित आदेश जारी करेंगे?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हां, आयुक्त महोदय नर्मदापुरम संभाग के प्रकरण क्रमांक 0103 अपील वर्ष 2021-22 में पारित आदेश दिनांक 29.06.2022 अनुसार ग्राम कोटवार की नियुक्ति के संबंध में दिए गए निर्देश के परिपालन में तहसीलदार शाहपुर द्वारा प्रकरण क्रमांक 0001/अ-56/2024-25 आदेश दिनांक 14.08.2024, मौजा तेन्दूखेड़ा में कोटवार की नियुक्ति का आदेश पारित किया गया है। पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) 1. आयुक्त महोदय नर्मदापुरम संभाग के प्रकरण क्रमांक 0103/अपील/2021-22 में पारित आदेश दिनांक 29.06.2022 में अपीलार्थी बबलू वल्द कानू द्वारा प्रस्तुत द्वितीय अपील स्वीकार कर तहसीलदार न्यायालय को निर्देशित किया कि वह स्थाई ग्राम कोटवार की नियुक्ति हेतु नवीन सिरे से विधिवत ईश्तहार का प्रकाशन कर विधिवत आवेदन पत्र आमंत्रित करते हुए इस अपीलार्थी को भी समूचित सुनवाई का अवसर प्रदान किए जाने के उपरांत प्राप्त आवेदन पत्रों के संबंध में विधिवत ग्राम पंचायत का प्रस्ताव प्राप्त कर संहिता की धारा-230 में वर्णित प्रावधानों के आलोक में ग्राम तेन्दूखेड़ा के स्थाई ग्राम कोटवार की नियुक्ति हेतु विधिसम्मत कार्यवाही करें। 2. तहसीलदार शाहपुर द्वारा प्रकरण क्रमांक 0001/अ-56/2024-25 मौजा तेन्दूखेड़ा में स्थायी कोटवार की नियुक्ति हेतु नवीन सिरे से विधिवत ईश्तेहार का प्रकाशन कर, कोटवार नियुक्ति हेतु आवेदन पत्र प्राप्त कर, विधिवत आवेदन पत्र आमंत्रित करते हुए, उभय पक्षों को समुचित सुनवाई का अवसर प्रदान करते हुए, प्राप्त आवेदन पत्रों पर ग्राम सभा का प्रस्ताव प्राप्त कर म.प्र.भू.रा. संहिता की धारा 230 (2) नियम 5 का अनुसरण करते हुए कोटवार की नियुक्ति का आदेश पारित किया। (ग) ग्राम सभा की बैठक दिनांक 30.11.2022 में बबलू वल्द कानू बामने को कोटवार नियुक्त करने हेतु प्रस्ताव पारित किया गया। 2.तहसीलदार न्यायालय में माननीय आयुक्त महोदय के आदेश में दिये गये निर्देशानुसार कोटवार नियुक्ति हेतु कुल 7 व्यक्तियों (1. शिवपाल वल्द कालूराम निवासी तेंदूखेड़ा, 2. अनिल वल्द हिरदेराम बामने निवासी तेंदूखेड़ा, 3. संजय वल्द दिलीप निवासी तेंदूखेड़ा, 4. कमलेश वल्द मनोहर निवासी तेंदूखेड़ा, 5. राजू बामने वल्द आशाराम निवासी तेंदूखेड़ा, 6. गुरुवेश वल्द बबलू बामने निवासी तेंदूखेड़ा, 7. बबलू वल्द कानू बामने निवासी तेंदूखेड़ा) द्वारा आवेदन दिया। जिस पर ग्राम सभा से प्रस्ताव प्राप्त किया गया। ग्राम सभा तेंदूखेड़ा द्वारा दिनांक 30.11.2022 एवं ग्राम सभा कावलीखेड़ा द्वारा दिनांक 01.12.2022 को दो व्यक्तियों के लिए पृथक-पृथक प्रस्ताव दिये गये। जिसमें ग्राम कावलीखेडा ग्राम सभा दिनांक 01.12. 2022 का प्रस्ताव अपूर्ण पाया गया। 3. तहसीलदार न्यायालय में आवेदक अनिल वल्द हिरदेराम पूर्व कोटवार का पुत्र है तथा पूर्व से ही कोटवारी कार्य में भाग लेते रहा है इस बात की पुष्टि साक्षियों द्वारा भी की गयी है एवं ग्राम सभा तेंदूखेड़ा एवं कावलीखेडा के प्रस्ताव में विरोधाभाष होने के कारण तथा संहिता की धारा 230 (2) के नियम 5 अनुसार कोटवार की नियुक्ति के समय सेवानिवृत्त कोटवार के निकट संबंधी को प्राथमिकता दी जावेगी (राजस्व निर्णय पेज 11 गंगाचरण विरूद्ध शोभाराम एवं गोलाप्रसाद वल्द चैतू) उक्त राजस्व निर्णय का अनुसरण करते हुए कोटवार की नियुक्ति किये जाने का तहसीलदार दवारा आदेश पारित किया गया है। (घ) आयुक्त नर्मदापुरम संभाग के प्रकरण क्रमांक 0103 अपील वर्ष 2021-22 में पारित आदेश दिनांक 29.06.2022 में दिए गए निर्देश के परिपालन में तहसीलदार शाहपुर द्वारा प्रकरण क्रमांक 0001/अ-56/2024-25 में दिनांक 14.08.2024 को संशोधित आदेश जारी किया जा चुका है। पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार।
भूमि का नामांतरण
[राजस्व]
58. ( क्र. 1683 ) श्री बाला बच्चन : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) आमना बी पत्नी स्व. रमजान खां निवासी इतवारी मोहल्ला ग्राम शहडोल तहसील सोहागपुर जिला शहडोल के नाम वर्ष 1988-89 में ग्राम (मौजा) शहडोल पटवारी हल्का शहडोल की भूमि आराजी खसरा नंबर 221 के जुज रकबा 0.044 हेक्टेयर की भूमि स्वामीधारी थी। यदि हाँ, तो उनकी फौत होने के बाद उक्त आराजी किसके नाम पर आई, उनके नाम पृथक-पृथक आराजी खसरा एवं रकबा बताने का कष्ट करें। (ख) क्या आमना बी पत्नी रमजान खां के द्वारा अपने जीवनकाल में अपनी बड़ी बहू बरकत बी उर्फ बरकत खातून पत्नी जमील अहमद उर्फ जमील मोहम्मद के नाम पर अपनी स्व-अर्जित भूमि ग्राम शहडोल इतवारी मोहल्ला में स्थित आरजी खसरा नंबर 221 रकबा 0.044 हेक्टेयर में से जरिए इकरारनामा आधा भाग दिए जाने का लेख किया गया था। यदि हाँ, तो बताएं बरकत बी के नाम आमना बी द्वारा दी गई सम्पत्ति का नामांतरण किया गया है. यदि हाँ, तो बताएं यदि नहीं, किया गया है तो इसके लिए कौन दोषी हैं और भविष्य में स्वर्गीय बरकत बी के वारसान के नाम पर नामांतरण किया जाकर उक्त आराजी का कब्जा सौंपा जाएगा। निश्चित समय-सीमा बताएं? (ग) प्रश्नांश (क) वर्णित में फौती नामांतरण के बाद उनके वारिस स्वर्गीय आमना बी के वारसान के नाम पर नामांतरण हुआ है, यदि हाँ, तो उनके नाम बतावें, यदि नहीं, तो उसके लिए कौन दोषी है और किसके नाम पर हुआ है, बताएं। (घ) क्या न्यायालय तहसीलदार सोहागपुर जिला शहडोल के समक्ष नामांतरण प्रकरण क्रमांक 0432/अ-6/2024-25 में श्री जान मोहम्मद ने सिजरा खानदान दिनांक 16/05/2024 को एवं प्रकरण क्रमांक 038/अ-6/1999-2000 मौजा शहडोल तहसील सोहागपुर में दिनांक 26/06/2001 में सिजरा खानदान पेश किया गया था। यदि हाँ, तो कौन सा सिजरा खानदान सत्य है। कूटरचित एवं फर्जी सिजरा खानदान पेश करके सम्पूर्ण पैतृक आराजी (भूमि) का फर्जी नामांतरण करवाने के लिए कौन दोषी है। उनके विरूद्ध क्या कार्यवाही की गई है। यदि नहीं, की गई है तो उनके विरूद्ध क्या शासन कार्यवाही करेगा। यदि हाँ, तो निश्चित समय-सीमा बताएं।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) प्रश्नधीन भूमि ग्राम शहडोल आराजी ख.नं.-221 का जुज रकवा 0.044 है. भूमि स्थित ग्राम-शहडोल वर्ष 1988-89 के खसरा अनुसार श्रीमती आमना बी पति रमजान खां सा.भूमि स्वामी के नाम से दर्ज अभिलेख है अर्थात प्रश्नाधीन भूमि के वर्ष 1988-1989 में आमना बी पत्नी स्व. रमजान खान निवासी इलवारी मोहल्ला शहडोल तहसील-सोहागपुर जिला शहडोल म.प्र. में स्यामीधारी थी उपलब्ध मृत्यु प्रमाण के अनुसार आमना बी का देहान्त दिनांक 21.05.1992 को हुआ था। उनके देहान्तोपरान्त न्यायालय तहसीलदार सोहागपुर के राजस्य प्रकरण क्र.-0432/31-6/2024-25 आदेश दिनांक 17/05/2024 के आदेशानुसार उक्त आराजी का फौती नामान्तरण मृतक भूमि स्वामी की पुत्रवधु फिरोज बानो पति स्व. मंजूर अहमद एवं पौत्र जान मोहम्मद पिता स्व. अहूर अहमद के नाम दर्ज किया गया है, जो कि केवल एक खसरा नं.-221/2 रकबा 0.044 हे. के रूप में वर्तमान में दर्ज है। (ख) यह कि आमना बी के द्वारा अपने जीवन काल में अपनी बड़ी बहू वरकत बी उर्फ बरकत खातून पत्नी जमील अहमद के नाम पर अपंजीकृत इकरारनामा लेखबद्ध किया था। जिसमें इकरारनामा यहिता पुत्र के द्वारा नामान्तरण हेतु पेश किया गया जिसे तहसीलदार द्वारा आदेश दिनांक-07/08/2002 यह लेख कर आवेदन पत्र निरस्त किया गया कि इकरारनामा अपंजीकृत होना एवं आवेदकगण के माता का भूमि पर स्वत्व का निर्धारण नहीं करता है। अतः आवेदकगण का आवेदन खारिज किया गया। उक्त दस्तावेज में स्वत्व का निर्धारण किया जाना है जिसकी अधिकारिता सिविल न्यायालय को है। अतः अधीनस्थ न्यायालय से कोई कार्यवाही नहीं की जा सकती है न ही कोई समय-सीमा बताई जा सकती है। (ग) प्रश्नांश (क) के वर्णनानुसार प्रश्नाधीन भूमि का फौती नामान्तरण आवेदक जान मोहम्मद के द्वारा प्रस्तुत सेजरा प्रमाण-पत्र मृत्यु प्रमाण-पत्र एवं आवेदक के शपथ-पत्र के आधार पर तहसीलदार सोहागपुर में रा.प्र.क्र.-0432/31-6/2024-25 आदेश दिनांक-17/05/2024 के द्वारा सेजरा में दर्शाये गये वारिसान फिरोज बानो पति स्थ. मंजूर अहमद एवं जान मोहम्मद पिता स्व.जहूर अहमद के नाम दर्ज किया गया है। आवेदक जान मोहम्मद के द्वारा प्रस्तुत उक्त सेजरा पार्षद वार्ड नं.-8 नगरपालिका परिषद पाली के द्वारा जारी किया गया है। साथ ही आवेदक जान मोहम्मद के द्वारा सेजरा के समर्थन में शपथ-पत्र प्रस्तुत किया गया है, जिसके आधार पर निम्नानुसार कार्यवाही करते हुए उपलब्ध वारिसान के नाम फौती नामान्तरण की कार्यवाही की गई है। (घ) प्रश्नाधीन भूमि के राजस्व प्रकरण क्रमांक-0432/3-6/2024/25 में जान मोहम्मद के द्वारा प्रस्तुत सेजरा खानदान एवं प्रकरण क्रमांक-038/3-6/2020 में आवेदन पत्र में लेख सेजरा में भिन्नता है इसी भिन्नता को आधार बनाते हुये हितबद्ध पक्षकारों के द्वारा न्यायालय अनुविभागीय अधिकारी सोहागपुर के समक्ष अपील प्रस्तुत की है जिसका अपील क्रं.-0188/अपील/2024-25 मो. सादिक बनाम जान मोहम्मद के नाम से प्रकरण प्रचलन में है, जिसमें आगामी पेशी दिनांक 25.03.2025 है जिसमें गुण-दोष के आधार पर निराकरण किया जाना शेष है। वर्तमान में अपील प्रकरण प्रचलित होने से शेष जानकारी निरंक है।
भवन विहीन शासकीय स्कूलों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
59. ( क्र. 1686 ) श्री देवेन्द्र रामनारायन सखवार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र अम्बाह के अंतर्गत कितने भवन विहीन शासकीय स्कूल संचालित हैं? संख्यावार सूची उपलब्ध कराएं। (ख) क्या भवन विहीन शासकीय स्कूलों में छात्र-छात्राओं को पढ़ने में काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है? यदि हाँ, तो क्या सरकार भवन विहीन शासकीय स्कूलों में नवीन स्कूल भवनों का निर्माण करायेगी? यदि हाँ, तो कब तक?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत शासकीय प्राथमिक शालाओं की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। शासकीय माध्यमिक एवं हाईस्कूलों के उन्नयन अपरांत माध्यमिक शालाओं एवं शासकीय हाईस्कूल के भवन ही क्रमश: हाईस्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल के भवन है। अत: जानकारी निरंक है। (ख) भवन विहीन शासकीय प्राथमिक शालाओं में पढ़ने वाले छात्र छात्राओं की व्यवस्था निकटतम अपलब्ध पंचायत भवन, स्वराज भवन, आंगनवाड़ी भवन एवं अन्य उपलब्ध भवनों में की गई है। उत्तरांश 'क' के प्रकाश में शेषांश उद्भूत नहीं होता। शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं के नवीन भवन का निर्माण बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है।
मंदिरों का जीर्णोद्धार
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
60. ( क्र. 1708 ) श्री अरविन्द पटैरिया : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राजनगर विधानसभा जिला छतरपुर अंतर्गत तहसील राजनगर में शासन संधारित चंदेल कालीन कुल-34 एवं तहसील लवकुशनगर में कुल-20 अत्यन्त प्राचीन मंदिर हैं। जो पर्याप्त बजट के अभाव में जर्जर अवस्था में हैं? (ख) प्रश्नांश (क) के अनुक्रम में उक्त मंदिरों के जीर्णोद्धार एवं मरम्मत हेतु शासन की क्या योजना है? विवरण देवें। कब तक इन मंदिरों के जीर्णोद्धार हेतु बजट आवंटन कर दिया जावेगा और यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। (ख) शासन संधारित मंदिरों के जीर्णोद्धार कार्य हेतु जिले द्वारा आयुक्त के माध्यम से नियमानुसार प्रस्ताव प्राप्त होने पर कार्य की औचित्यता एवं बजट की उपलब्धता के आधार पर राशि आवंटित की जाती है। वर्तमान में कोई प्रस्ताव शासन स्तर पर लंबित नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
तालाबों का जीर्णोंद्धार
[पर्यटन]
61. ( क्र. 1709 ) श्री अरविन्द पटैरिया : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजनगर विधानसभा जिला छतरपुर में खजुराहो सहित अन्य स्थानों पर कई चंदेल कालीन तालाब स्थित हैं। जो जीर्णों अवस्था में हैं। (ख) शासन इन तालाबों के सौंदर्यीकरण के लिए क्या प्रयास कर रहा है? (ग) क्या इन तालाबों को सुंदर बनाकर जल, पर्यटन, स्थल घोषित नहीं किया जा सकता? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) यदि इस संबंध में क्या कार्यवाही हुई और कब तक इनका सौंदर्यीकरण कर दिया जावेगा?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। (ख) वर्तमान में कोई योजना प्रस्तावित नहीं है। (ग) मध्यप्रदेश पर्यटन नीति 2016 यथा संशोधित नीति 2019 में किसी भी स्थल को पर्यटन स्थल घोषित करने का कोई प्रावधान नहीं है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश (ग) अनुसार।
स्थानीय कलाकारों की प्रदर्शनी को शामिल करना
[पर्यटन]
62. ( क्र. 1710 ) श्री अरविन्द पटैरिया : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता द्वारा प्रेषित पत्र क्रमांक-580 दिनांक-05/02/25 के द्वारा खजुराहो जिला छतरपुर में प्रतिवर्ष माह फरवरी में आयोजित खजुराहो नृत्य समारोह में स्थानीय कलाकारों को शामिल करने एवं स्थानीय प्रदर्शनी/स्टॉल लगाये जाने का अनुरोध किया गया था? यदि हाँ, तो इस संबंध में क्या कार्यवाही हुई? विवरण देवें। (ख) यदि उक्त विषय के संबंध में सकारात्मक कार्यवाही हो रही हो तो की गई कार्यवाही से संबंधित दस्तावेज उपलब्ध करावें और यदि नहीं, तो क्यों? (ग) खजुराहो नृत्य समारोह में की गई माँग कब तक स्वीकृत कर दी जावेगी? निश्चित समयावधि बतायें और यदि नहीं? तो कारण बतायें।
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) खजुराहो नृत्य समारोह, खजुराहो में स्थानीय शिल्पियों को पर्याप्त स्टॉल उपलब्ध कराये जाते है। (ख) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट ''अ'' अनुसार। (ग) खजुराहो नृत्य समारोह, खजुराहो में की गई मांग की पूर्ति की गई है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट ''ब'' अनुसार। शेष का प्रश्न उपलब्ध नहीं होता है।
शाहगढ़ में सिविल अस्पताल की स्वीकृति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
63. ( क्र. 1713 ) श्री वीरेन्द्र सिंह लोधी : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बण्डा विधानसभा के सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र शाहगढ़ की विगत 3 वर्षों में माहवार ओपीडी संख्या क्या है? (ख) उक्त सीएचसी में उपलब्ध स्वास्थ सुविधाओं जैसे बिस्तर एवं कार्यरत डॉक्टरों की संख्या क्या है? (ग) सीएचसी शाहगढ़ में विभिन्न विशेषज्ञों डॉक्टरों के कितने पद रिक्त हैं? (घ) किसी क्षेत्र में 30 बिस्तरीय एवं 50 बिस्तरीय सिविल अस्पताल बनाने के लिये क्या मापदण्ड निर्धारित है? क्या शाहगढ़ में सिविल अस्पताल प्रारंभ करवाया जा सकता है? (ड.) सिविल अस्पताल की लम्बे समय से चल रही मांग को दृष्टिगत रखकर, क्या शाहगढ़ के लिये 30 या 50 बिस्तरीय सिविल अस्पताल स्वीकृत की जायेगी? (च) अगर हाँ तो कब तक? अगर नहीं तो इसका क्या कारण है?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ''अनुसार। (ख) एवं (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब''अनुसार। (घ) किसी क्षेत्र में 30 बिस्तरीय सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र स्थापित किये जाने हेतु जनजातीय क्षेत्र में न्यूनतम 80 हजार की जनसंख्या तथा न्यूनतम 1 लाख 20 हजार की जनसंख्या सामान्य क्षेत्र में आवश्यक है। सामान्यतः 50 बिस्तरीय सिविल अस्पताल की स्थापना नहीं की जाती है अपितु 30 बिस्तरीय सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र का जनसंख्या अधारित मापदण्ड तथा बेड ऑक्यूपेंसी रेट के आधार पर उन्नयन किया जाता है। जी नहीं, जनसंख्या के निर्धारित मापदण्ड अनुसार उन्नयन की पात्रता नहीं है। (ड.) जी नहीं। (च) प्रश्नांश (ड.) के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
डायवर्टेड भूमि पर मकान निर्माण
[राजस्व]
64. ( क्र. 1780 ) श्री ठाकुर दास नागवंशी : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या अनुसूचित जन जाति वर्ग के किसी भी व्यक्ति द्वारा डायवर्टेड भू-खण्ड पर निर्मित मकान को क्रय करने हेतु चाहे वह नगरीय सीमा में हो या ग्रामीण सीमा में हो सक्षम अधिकारी की स्वीकृति की आवश्यकता नहीं होती हैं? (ख) क्या अनुसूचित जनजाति वर्ग के व्यक्ति द्वारा क्रय किये गये डायवर्टेड भू-खण्ड पर निर्मित मकान को विक्रय करते समय सक्षम अधिकारी की स्वीकृति आवश्यक होती हैं? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) का उत्तर यदि हाँ, में है तो क्या इस वर्ग के व्यक्तियों द्वारा डायवर्टेड भू-खण्ड पर निर्मित मकान के क्रय में सक्षम अधिकारी की अनुमति की आवश्यकता न होना तथा विक्रय करते समय सक्षम अधिकारी की अनुमति लेना क्या शासन के नियम में विसंगति को नहीं दर्शाता हैं यदि हाँ, तो क्या शासन द्वारा इन नियमों में संशोधन कर उक्त वर्ग के व्यक्तियों द्वारा डायवर्टेड भू-खण्ड पर निर्मित मकान के विक्रय में सक्षम अधिकारी की स्वीकृति की अनिवार्यता को समाप्त करते हुये नियम बनाये जावेंगे यदि हाँ, तो कब तक नहीं तो क्यों?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) जी नहीं, नियमों में संशोधन का कोई प्रस्ताव वर्तमान में इस कार्यालय में विचाराधीन नहीं है।
भूखंडों का नामांतरण
[राजस्व]
65. ( क्र. 1784 ) श्री निलेश पुसाराम उईके : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला-पांढुर्णा व अन्य जिलों की तहसील व राजस्व अनुभागों में पदस्थ लिपिक, आर.आई. व पटवारी एक ही स्थान में 04 वर्षों से अधिक समय से पदस्थ हैं व इन्हें अन्यत्र पदस्थ किये जाने हेतु कोई पत्र प्राप्त हुए हैं? यदि हाँ, तो उन्हें शासन के नियमानुसार कब तक अन्यत्र पदस्थ किया जावेगा? (ख) क्या जिला-पांढुर्णा व छिंदवाड़ा में एस.टी. व्यक्तियों को अपनी भूमि गैर ST को विक्रय करने की अनुमति देते समय उनके पास जीवन-यापन हेतु नियमानुसार शेष भूमि रखी है? यदि नहीं, तो क्यों? क्या उक्त जिलों में वर्ष 2018 से एस.टी. की भूमि को गैर एस.टी. को विक्रय करने की दी गई अनुमति नियमानुसार थी? यदि हाँ, तो कितनी भूमि की अनुमति दी गई व नियम क्या है? (ग) क्या जिला-पांढुर्णा, छिंदवाड़ा व सिवनी में वर्ष 2018 से आज दिनांक तक ग्रा.पं.स्तर में अवैध कॉलोनी चिन्हांकित की गई? यदि हाँ, तो उनके नाम बतावें व उनके विरूद्ध दाण्डिक कार्यवाही कर FIR दर्ज की गई? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) क्या प्रश्नांश 'ग' में वर्णित जिलों में निम्न व कमजोर आय वर्ग के व्यक्ति हेतु भूखंड आरक्षित रखने के प्रावधान किए गए है? यदि हाँ, तो क्या उनका निराकरण विधि अनुसार किया गया है? यदि नहीं, तो क्यों? क्या वैध कालोनी में विकास, शर्तानुसार पूर्ण रूप से किये गए हैं?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। इन्हें अन्यत्र पदस्थ किये जाने हेतु विभिन्न जिलों में समय-समय पर पत्र प्राप्त हुए हैं। इन्हें शासन द्वारा जारी आगामी स्थानांतरण नीति में निहित प्रावधान अनुसार अन्यत्र पदस्थ करने की कार्यवाही की जावेगी। (ख) जिला पांढुर्णा का गठन अक्टूबर 2023 में हुआ है। जिला गठन के पश्चात् वर्तमान तक अनुसूचित जनजाति वर्ग के किसी भी सदस्य की भूमि गैर अनुसूचित जनजाति को विक्रय किये जाने की अनुमति प्रदान नहीं की गयी है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। जिला छिन्दवाड़ा में एस.टी. व्यक्तियों को अपनी भूमि गैर एस.टी. को विक्रय करने की अनुमति देते समय उनके पास जीवन-यापन हेतु नियमानुसार शेष भूमि रखी गई हैं। वर्ष 2018 से एस.टी. की भूमि को गैर एस.टी. को विकय करने की अनुमति नियमानुसार प्रदाय की गई है। कुल 90.822 हे. भूमि की अनुमति म.प्र.भू. राजस्व संहिता-एस 1959 की धारा 165 में वर्णित प्रावधानों के तहत प्रदाय की गई है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। जिला छिन्दवाड़ा में वर्ष 2018 से आज दिनांक तक ग्राम पंचायत स्तर में अवैध कालोनी चिन्हांकित की गई हैं जिसमें शैलेन्द्र सोनी खेमलाल पिता अनखलाल शकुन बाई पति शिवप्रसाद मितियाबाई पिता अनखलाल, कोमल पिता तिलोकी भगवतराव पिता गेंदराव नितेश डेहरिया, नेमीचंद वर्मा अनिल परतेती, विनोद, विमला, लेखराम पिता दादूराम, छिद्दीलाल इवनाती. रवि सूर्यवंशी. गोविंद पिता गंगाराम श्रीराम पिता केशवराव पवार, दीपू पिता रग्घू प्रभाकर कमलाकर पिता सिरपतराव मोहित पिता मानकलाल, सागर पिता विलास, अशोक पिता गुलाब, सचिन पिता किरण, श्रीराम पिता केशवराव के विरूद्ध दाण्डिक कार्यवाही कर एफ.आई.आर. दर्ज की गई हैं। जिला सिवनी के अंतर्गत तहसील सिवनी की ग्राम पंचायत स्तर में 34 अवैध कॉलोनी चिन्हांकित की गई है। उक्त 34 प्रकरण में से 05 प्रकरणों में मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचायत द्वारा FIR दर्ज की जा चुकी है तथा 15 प्रकरणों में FIR दर्ज कराए जाने हेतु तहसीलदार/मुख्य कार्यपालन अधिकारी जनपद पंचयात के पास लंबित हैं तथा शेष 14 प्रकरण न्यायालय में गतिशील है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट-'अ'अनुसार। तहसील केवलारी की ग्राम पंचायत स्तर पर 19 अवैध कॉलोनी चिन्हांकित की गई है। जिनके विरूद्ध FIR दर्ज की गई है, जानकारी संलग्न परिशिष्ट-'ब'अनुसार। (घ) प्रश्नांश (ग) के सन्दर्भ में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। जिला छिन्दवाड़ा में निम्न व कमजोर आय वर्ग के व्यक्ति हेतु भूखण्ड आरक्षित रखने के प्रावधान किए गये हैं। मध्यप्रदेश ग्राम पंचायत (कालोनी का विकास) नियम 2014 में वर्णित प्रावधानों के तहत निराकरण किया गया हैं। वैध कालोनी में विकास शर्तानुसार पूर्ण रूप से किये गये हैं। जी हाँ। नियमानुसर निराकरण विधि अनुसार किया गया है। जिन कॉलोनाईजरों द्वारा उक्त शर्तों का पालन नहीं किया गया है, के विरूद्ध नियमानुसार कार्यवाही की जा रही है।
पुजारियों का मानदेय बढ़ाने एवं चढावें में उनका भाग निर्धारित किया जाना
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
66. ( क्र. 1836 ) श्री शरद जुगलाल कोल : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शहडोल व रीवा जिले में कितने शासकीय मंदिर है। इनमें कितनी संपदा मंदिर के नाम राजस्व अभिलेख में दर्ज है। दर्ज राजस्व अभिलेख अनुसार मौके पर कौन काबिज है। अगर मंदिर की आराजियों पर अन्य जबरन कब्जा कर अतिक्रमण किया गया है तो अतिक्रमण हटाये जाने बाबत् क्या निर्देश देगे बतावें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार शासकीय मंदिरों में कितने पुजारियों की नियुक्ति की गई है इनको कितना मानदेय एवं भोगप्रसाद हेतु शासन द्वारा राशि प्रदान की जा रही है की जानकारी मंदिरवार देवें। (ग) प्रश्नांश (क) के मंदिरों में प्रश्नांश (ख) अनुसार नियुक्ति पुजारियों को मंदिरों में चढ़ने वाले चढ़ावे के रूप में प्राप्त रूपये एवं अन्य सामग्रियों में कितने प्रतिशत राशि पुजारियों को दी जा रही है। अगर नहीं दी जा रही है तो इस बावत् क्या निर्देश देंगे। रीवा जिले के लक्ष्मण बाग से संलग्न चिरहुला मंदिर में चढ़ने वाले चढ़ावे की राशि एवं अन्य पर नियुक्त पुजारियों को 30-40 प्रतिशत राशि उनके गुजारे भत्ते एवं परिवार के परवरिश के रूप में नहीं दी जा रही है। दिये जाने बाबत् क्या निर्देश देंगे? (घ) प्रश्नांश (क) के मंदिरों में प्रश्नांश (ख) अनुसार नियुक्त पुजारियों को भोग प्रसाद एवं मानदेय के रूप में मिलने वाली राशि की बढ़ोत्तरी करने एवं चिरहुला मंदिर के चढ़ावे की राशि एवं अन्य पर 30-40 प्रतिशत दिये जाने बाबत् क्या निर्देश देंगे इसी तरह अन्य मंदिरों में प्राप्त चढ़ावे की राशि से 30-40 प्रतिशत राशि देंगे। जबकि महाकाल मंदिर एवं चिरहुला मंदिर रीवा में पूर्व में इस तरह की व्यवस्था थी, इसके पुनः लागू करने एवं मानदेय में वृद्धि बाबत् क्या निर्देश देंगे बतावें अगर नहीं तो क्यों?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) शहडोल में 02 एवं रीवा जिले में 92 मंदिर शासन संधारित मंदिरों की सूची में दर्ज है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। शहडोल एवं रीवा जिले के शासकीय मंदिरों की भूमि पर अतिक्रमण न होकर मंदिरों का ही कब्जा है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जिला शहडोल एवं रीवा अंतर्गत शासन संधारित मंदिरों में नियुक्त पुजारियों को नियमानुसार मानदेय प्रदान किया जाता है। रीवा जिले के लक्ष्मणबाग संस्थान अंतर्गत चिरहुला मंदिर के पुजारियों को 5000/- मासिक मानदेय दिया जा रहा है। पुजारियों के गुजारा भत्ता हेतु मंदिर, आरती आदि में पर्याप्त राशि पुजारियों को प्राप्त होती है। मंदिर में चढ़ने वाले चढ़ावे की राशि एवं अन्य सामग्रियों में से पुजारियों को हिस्सा दिये जाने के संबंध में विभाग स्तर पर कोई दिशा-निर्देश नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) प्रश्नांश 'ग' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
आदिवासियों की भूमि
[राजस्व]
67. ( क्र. 1850 ) श्री विश्वामित्र पाठक : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या ललितपुर-सिंगरौली रेल परियोजना से प्रभावित तहसील देवसर के ग्रामों आमों, सिलफ एवं तहसील बरगवां के ग्राम गिधेर में वनक्षेत्र में निवासरत आदिवासियों की भूमि एवं परिसम्पत्तियों का एवार्ड पारित किया गया है? (ख) यदि हाँ, तो प्रभावित वन क्षेत्र में निवासरत आदिवासियों को उनकी जमीन एवं परिसम्पत्ति के मुआवजे का कब तक वितरण किया जायेगा? (ग) यदि एवार्ड पारित नहीं किया गया है तो उक्त ग्रामों में वनक्षेत्र में निवासरत आदिवासियों की भूमि एवं परिसम्पत्ति का एवार्ड किया जाकर मुआवजा का वितरण कब तक किया जायेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) उपखण्ड देवसर अंतर्गत ग्राम आमों, सिलफ एवं गिधेर की वन एवं राजस्व भूमियों का एवार्ड पारित नहीं किया गया है। (ख) एवं (ग) प्रश्नांश 'क' अनुसार भू-अर्जन की कार्यवाही प्रचलित न होने से प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है।
स्कूलों का भवन निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
68. ( क्र. 1872 ) श्री श्रीकान्त चतुर्वेदी : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मैहर विधानसभा क्षेत्रान्तर्गत हाई स्कूल से हायर सेकेण्डरी में उन्नयन की गयी शालाओं में क्या नवीन हायर सेकेण्डरी शाला भवन निर्माण कार्य कराया जाना स्वीकृत किया गया हैं। यदि हां, तो किन-किन स्कूलों में स्कूलों के नामवार, स्थानवार स्वीकृत राशिवार पृथक-पृथक जानकारी दी जावें। (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में यदि नहीं, तो क्या वित्तीय वर्ष 2025-26 में मैहर क्षेत्र की हायर सेकेण्डरी स्कूलों में नवीन हायर सेकेण्डरी शाला भवन निर्माण कराया जाना स्वीकृत किया जावेगा? यदि हां, तो समयावधि बतायी जाय, यदि नहीं, तो कारण सहित जानकारी दी जावे। (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के प्रकाश में आये तथ्य के संबंध में क्या शिक्षण व्यवस्था शाला भवन ना होने से प्रभावित रहने के कारण विगत वर्ष में इसकी याचिकायें भी प्रस्तुत की गयी थी? यदि हां, तो ऐसी याचिकाओं में प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही की गयी हैं? कृत कार्यवाही की अद्यतन जानकारी उपलब्ध करायी जावे।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) शासकीय शालाओं के भवन निर्माण कार्य बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। अतः निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। अतः शेषांश उद्भूत नहीं होता। (ग) जी हाँ। आवश्यकतानुसार स्कूल भवन एवं अतिरिक्त कक्ष निर्माण की आवश्यकता वाली सूची तैयार की गई है। नवीन भवन निर्माण कार्य बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है।
रेल लाइन हेतु अधिग्रहण की गयी भूमियों का मुआवजा
[राजस्व]
69. ( क्र. 1874 ) श्री श्रीकान्त चतुर्वेदी : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सतना जिला अंतर्गत ग्राम माह के किसानों की भूमियां सतना से रीवा रेल लाइन निर्माण हेतु वर्ष 1984-85 में अधिग्रहण में ली गयी थी? यदि हां, तो इस ग्राम से संबंधित सभी भूमि स्वामियों की आराजी नम्बरवार, रकबावार, भुगतान की गयी मुआवजा राशिवार जानकारी दी जावें। (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश क्या उक्त ग्राम के किसानों की अधिग्रहित भूमियों के प्रकाशन के बाद किसानों का नाम खसरे से पृथक कर भारत सरकार दर्ज कर दिया गया है? यदि हां, तो ऐसे किसान जो की अभी मुआवजा राशि प्राप्त नहीं कर पाये उन्हें कब तक मुआवजा राशि भुगतान कर दी जावेगी? समयावधि बतायी जावे? साथ ही मुआवजा राशि भुगतान के लिये शेष किसानों के नामवार आराजी नम्बर तथा रकबावार स्वीकृत मुआवजा राशिवार जानकारी भी उपलब्ध करायी जावें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। सतना जिला अंतर्गत ग्राम मांद के किसानों की भूमियां सतना से रीवा रेल लाइन निर्माण हेतु इस कार्यालय के प्र.क्र. 124382/87-88 आदेश दिनांक 24/1/89 द्वारा 47 कृषकों की आराजियों का अधिग्रहण किया गया था। ग्राम से संबंधित सभी भूमि स्वामियों की आराजी नंबरवार, रकबावार निर्धारित मुआवजा राशिवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) हां, उक्त ग्राम के किसानों की अधिग्रहीत भूमियों के अधिग्रहण के बाद किसानों का नाम खसरे से पृथक कर भारत सरकार के नाम दर्ज कर दिया गया है। चूंकि प्रश्नांश 'क' अनुरूप सभी कृषकों जिनकी भूमि का अधिग्रहण किया गया था, पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार भूमि स्वामियों को मुआवजा भुगतान तत्कालीन समय में कर दिया गया है। मुआवजा भुगतान शेष न होने से शेष प्रश्नांश का प्रश्न ही नहीं उठता है।
लिपिक वर्गीय कर्मचारियों को समयमान वेतनमान का लाभ
[स्कूल शिक्षा]
70. ( क्र. 1890 ) श्री आशीष गोविंद शर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश में शिक्षा विभाग के लिपिकीय वर्ग के कर्मचारियों को समयमान वेतनमान दिये जाने का क्या प्रावधान है जानकारी दें। (ख) क्या विभाग में लिपिकीय वर्ग कर्मचारी को 10 वर्ष की सेवा अवधि पूर्ण होने के पश्चात् समयमान वेतनमान दिया जाता है? (ग) देवास जिले के अंतर्गत ऐसे कितने शिक्षा विभाग के लिपिक है जिन्हें 10, 20 अथवा 30 वर्ष की सेवा अवधि पूर्ण करने के पश्चात समयमान वेतनमान दिया गया है? उनके नाम बतावें। (घ) देवास जिले में शिक्षा विभाग में ऐसे कितने लिपिक है जिन्होंने 30 वर्ष की सेवा अवधि पूर्ण कर ली गई है किन्तु उन्हें समयमान वेतनमान का लाभ नहीं दिया गया, नाम बतावें एवं नहीं दिये जाने का कारण बतावें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-1 अनुसार है। (ख) जी हाँ। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-2 अनुसार है (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-3 अनुसार है। पात्र लोक सेवकों को समयमान-वेतनमान वित्त विभाग के निर्देश के अनुक्रम में विभागीय समिति के अनुमोदन उपरांत स्वीकृति आदेश जारी किया जाता है। जो एक सतत् प्रक्रिया है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी विदिशा की विभागीय जांच
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
71. ( क्र. 1917 ) श्री आरिफ मसूद : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विभाग प्रमुख, प्रशासकीय, वित्तीय प्रभार में पदस्थ/कार्यरत् अधिकारी के विरूद्ध आरोप-पत्र जारी कर विभागीय जाँच संस्थित करने के उपरांत जाँच प्रभावित न होने के उद्देश्य से पद से हटाने का प्रावधान है, यदि हाँ, तो नियम सहित जानकारी उपलब्ध करावें, यदि नहीं, तो क्यों? (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, जिला विदिशा को आरोप-पत्र दिनांक 09/10/2024 से जारी होने के 03 माह समय व्यतीत होने पर भी अब तक पद से क्यों नहीं हटाया गया है? पद से न हटाने में शासन का क्या हित है? (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में क्या मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, जिला विदिशा को संचालनालय स्वास्थ्य सेवाएं मध्यप्रदेश के द्वारा आरोप पत्र क्रमांक 4/शिका/सेल-5/आरोप पत्र/ 2024/ 1715 दिनांक 09/10/2024 को जारी किया गया था यदि हाँ, तो उपरोक्त पत्र के संदर्भ में संबंधित अधिकारी को कब तक पद से हटाया जाएगा। यदि नहीं, तो क्यों तथा आदेश के पालन न होने की दशा में कौन-कौन अधिकारी दोषी हैं?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा समय-समय पर जारी पत्रों के अनुरूप कार्यवाही किये जाने का प्रावधान है। उक्त के परिप्रेक्ष्य में शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) प्रश्न भाग की जानकारी उत्तरांश (क) अनुसार शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। प्रश्नांश (क) अनुसार शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
हायर सेकेण्ड्ररी स्कूलों को मूलभूत सुविधाओं की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
72. ( क्र. 1918 ) श्री प्रणय प्रभात पांडे : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या संभागीय कार्यालय माध्यमिक शिक्षा मण्डल जबलपुर के आदेश क्र.6539/सं का/परीक्षा 2024 जबलपुर दिनांक18-01-2024 के द्वारा संभाग के 9 उच्चतर-माध्यमिक-विद्यालयों को शासकीय संस्था कोड आवंटित किया गया था? आदेश की छायाप्रति देवें। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित कौन-कौन से उच्चतर-माध्यमिक-विद्यालयों के छात्र-छात्राओं को शासकीय उच्चतर माध्यमिक-विद्यालयों के समान मूलभूत-सुविधायें, जैसे- पाठ्य पुस्तकें-वितरण, अतिथि शिक्षक, निःशुल्क-साइकिल-वितरण, मेधावी-विद्यार्थियों को स्कूटी, लेपटाप एवं अन्य सम्पूर्ण शासकीय सुविधायें प्राप्त हो रही हैं? (ग) प्रश्नांश (ख) के उत्तर में यदि हां, तो किन-किन निकायाधीन-शासकीय-उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों को कौन-कौन सी शासकीय-मूलभूत सुविधायें प्राप्त हो रही हैं? यदि नहीं, हो रही हैं, तो इसके क्या कारण हैं? सम्पूर्ण जानकारी देवें। (घ) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित आदेश के स.क्र. 01 में पं. रामरतन-उच्चतर-माध्यमिक-विद्यालय-कौड़िया वि.खं.-बहोरीबंद-जिला-कटनी (शासकीय-संस्था-कोड 721186) के द्वारा सत्र् 2024-25 में शासकीय स्कूलों में लगने वाली सम्बद्धता शुल्क 13100/- जमा करने के बाद भी इस संस्था के छात्र-छात्रायें प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित शासकीय-स्कूलों में मिलने वाली मूलभूत सुविधाओं से वंचित है, जबकि प्रश्नांश (क) में उल्लेखित आदेश के स.क्र.03 में दर्शित बावनथड़ी गुरूकुल उच्चतर माध्यमिक-विद्यालय-बम्हनी, वि.खं. कटंगी-जिला-बालाघाट (शासकीय-संस्था कोड 781263) को उल्लेखित-सुविधायें प्रदान की जा रही हैं? (ड.) क्या शासन पं. रामरतन-उच्चतर-माध्यमिक-विद्यालय-कौड़िया वि.खं.-बहोरीबंद जिला कटनी के छात्र-छात्राओं को शासकीय-स्कूलों की भांति मूलभूत-सुविधायें उपलब्ध करायेगा? उत्तर में यदि हां, तो किस-प्रकार से कब तक, यदि नहीं, तो क्यों नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ, आदेश की प्रति संलग्न परिशिष्ट-1 अनुसार। (ख) एवं (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट-2 अनुसार। (घ) जी हाँ। (ड.) परीक्षण कर आवश्यक कार्यवाही की जायेगी।
स्कूलों का उन्नयन किया जाना
[स्कूल शिक्षा]
73. ( क्र. 1924 ) श्री नितेन्द्र बृजेन्द्र सिंह राठौर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मा.मंत्री जी को प्रश्नकर्ता द्वारा दिये गये पत्र क्र. 92/24 दिनांक 24/8/2024 एवं पत्र क्रमांक 103 दिनांक 23.02.2024 पर प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही की गई? अवगत करावें? (ख) विधानसभा क्षेत्र पृथ्वीपुर के अंतर्गत माध्यमिक शाला क्षेत्र (वार्ड-5-12) का हाई स्कूल में एवं हाई स्कूल मडिया का उन्नयन उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में किया जावेगा? कब तक भवन निर्माण की स्वीकृति प्रदान की जावेगी? (ख) कब तक क्षेत्र (वार्ड क्र.12) पृथ्वीपुर दिगौड़ा एवं मोहनगढ़ में मिनी स्टेडियम के निर्माण की स्वीकृति प्रदान की जावेगी? (ग) पृथ्वीपुर विधानसभा क्षेत्र शासकीय विद्यालयों में कब तक फर्नीचर एवं बाउण्ड्रीवॉल की स्वीकृति प्रदान की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन शाला उन्नयन बजट की उपलब्धता पर निर्भर है। मिनि-स्टेडियम निर्माण हेतु विभाग अन्तर्गत कोई योजना नहीं है। प्रश्नाधीन विधानसभा अन्तर्गत 13 माध्यमिक शालाओं में फर्नीचर उपलब्ध करा दिया गया है। शासकीय हाईस्कूल मड़िया एवं ततारपुरा को छोड़कर शेष हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों में उपलब्ध शैक्षणिक कक्षों में पर्याप्त फर्नीचर है। (ख) प्रश्नाधीन जानकारी उत्तरांश "क" के पूर्वांश अनुसार है। उन्नयन पश्चात हाईस्कूल के भवन ही, उच्चतर माध्यमिक विद्यालय भवन है। अतः शेषांश उद्भूत नहीं होता। (ख) जानकारी उत्तरांश "क" के मध्यांश अनुसार है। (ग) प्रश्नाधीन विधानसभा अंतर्गत फर्नीचर की जानकारी उत्तरांश "क" के उत्तरार्थ अनुसार है। बाउण्ड्रीवाल का निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
शिक्षाकर्मियों की वरिष्ठता का निर्धारण
[स्कूल शिक्षा]
74. ( क्र. 1925 ) श्री नितेन्द्र बृजेन्द्र सिंह राठौर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 1994-1998 में शिक्षाकर्मियों के पदों पर नियुक्त शिक्षकों को नियुक्ति दिनांक से वरिष्ठता के लिए उनकी सेवायें नवीन नियुक्ति शब्द से संविलियन के स्थान पर प्राथ.मा. उच्च.मा. शिक्षकों का नाम देकर उनकी 20 वर्ष की सेवाओं की वरिष्ठता समाप्त की गई? (ख) क्या सरकार में वरिष्ठता नियुक्ति दिनांक से देने का निर्णय किया जा रहा है? यदि हाँ, तो कब-तक? नहीं तो क्यों? (ग) क्या शिक्षकों की वरिष्ठता नियुक्ति दिनांक से पदोन्नति, क्रमोन्नति एवं अन्य लाभ दिये गये फिर ग्रेच्युटी एवं पेन्शन में लाभ क्यों नहीं दिया जा रहा है? (घ) क्या पेंशन/ग्रेच्युटी के लिये नियुक्ति दिनांक मान्य की जाकर लाभ दिया जायेगा एवं आई.एफ.एम.एस. पोर्टल वित्त विभाग द्वारा नियुक्ति दिनांक दर्ज कराया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी नहीं। (ख) नवीन संवर्ग में नियुक्त लोक सेवकों की वरिष्ठता, मध्यप्रदेश राज्य स्कूल शिक्षा सेवा (शैक्षणिक संवर्ग) सेवा शर्तें एवं भर्ती नियम 2018 के नियम 17 अनुसार निर्धारित किये जाने का प्रावधान है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) जी हाँ, ग्रेच्युटी एवं पेंशन के संबंध में शासकीय सेवक के रूप में की गई सेवा अवधि के आधार पर नियमों में प्रावधान अनुसार कार्यवाही की जाती है। (घ) उत्तरांश (ग) अनुसार शासकीय सेवा में नियुक्ति दिनांक से सेवा अवधि मान्य किये जाने का प्रावधान है। अतः शेषांश प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अवैध उत्खनन की जानकारी
[राजस्व]
75. ( क्र. 1945 ) डॉ. चिंतामणि मालवीय : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या ग्रामीण स्तर पर होने वाले अवैध खनिज उत्खनन को रोकने के लिए राजस्व विभाग के अमले को अधिकार प्रदत्त किए गए हैं? (ख) यदि हाँ, तो किस स्तर के अधिकार को अवैध उत्खनन की रोकथाम के लिए सशक्त किया गया है और जप्ति करने, रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लिए किस अधिकारी को सशक्त किया गया है? (ग) क्या खनिज विभाग द्वारा अवैध उत्खनन के मामले में राजस्व अमले को दिए गए अधिकार पर रोक लगा दी है? (घ) यदि हाँ, तो किस कानून/परिपत्र/ आदेश द्वारा रोक लगाई गई है। (ड.) यदि रोक हटा ली गई है तो किस कानून/परिपत्र/आदेश से हटाई गई है? (च) आलोट विधान सभा क्षेत्र में जनवरी 2024 से 14 फरवरी तक राजस्व अमले द्वारा अवैध उत्खनन के कितने प्रकरण दर्ज किए गए?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। (ख) मध्य प्रदेश खनिज (अवैध खनन, परिवहन एवं भंडारण) नियम, 2022 के नियम 23 के अंतर्गत अवैध उत्खनन, परिवहन एवं भण्डारण के मामलों में कार्यवाही किये जाने हेतु कलेक्टर/अपर कलेक्टर/डिप्टी कलेक्टर/अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व)/तहसीलदार/नायब तहसीलदार/जिला पंचायत का मुख्य कार्यपालक अधिकारी/जनपद पंचायत का मुख्य कार्यपालक अधिकारी/उप संचालक (खनिज प्रशासन)/प्रभारी अधिकारी खनिज शाखा/ सहायक खनिज अधिकारी/खनि निरीक्षक/प्रभारी अधिकारी (उड़नदस्ता) को अवैध उत्खनन की रोकथाम के लिए सशक्त और जप्ति करने, रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लिए सशक्त किया गया है। (ग) जी नहीं। (घ) उत्तरांश 'ग' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ड.) उत्तरांश 'ग' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (च) आलोट विधानसभा क्षेत्र में जनवरी 2024 से 14 फरवरी तक अवैध उत्खनन का कोई प्रकरण दर्ज नहीं हुआ है।
मेसर्स विन्टोकेम फार्मास्युटिकल्स फैक्ट्री की जांच
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
76. ( क्र. 1946 ) डॉ. चिंतामणि मालवीय : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या औद्योगिक क्षेत्र मक्सी रोड उज्जैन में संचालित दवाई फैक्ट्री मेसर्स विन्टोकेम फार्मास्युटिकल्स की विभागीय एक्सपर्ट द्वारा माह दिसंबर में कोई जांच की गई? (ख) यदि हाँ, तो कितने बिंदु पर जांच रिपोर्ट तैयार की गई? (ग) क्या जांच के दौरान दवाई फैक्ट्री में जो अनियमितता पाई गई थी उसे ज्यों का त्यों विभाग को सौंपा गया या उसमें कोई परिवर्तन किया गया? (घ) क्या मेसर्स विन्टोकेम फार्मास्युटिकल्स में वर्तमान में उत्पादन चालू है यदि हाँ, तो कब से यदि नहीं, तो कब से रुका हुआ है? (ड.) दिसंबर में जांच रिपोर्ट के आधार पर क्या इस फैक्ट्री को पुनः लाईसेंस जारी किया गया है?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी नहीं, अपितु माह अगस्त 2024 एवं जनवरी 2025 में निरीक्षण किया गया। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ग) जी हाँ, जी हाँ, शेष का प्रश्न नहीं उठता। (घ) जी नहीं, कार्यालयीन पत्र क्रमांक V/Misc/Licence- Compl/1/2024/5516 दिनांक 29.08.2024 में दिये गये निर्देशानुसार औषधि निर्माण अनुमति पर रोक लगाई गई की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। (ड.) जी नहीं। अपितु कार्यालयीन आदेश दिनांक 04.03.2025 के माध्यम से फर्म को प्रदत्त औषधि निर्माण अनुज्ञप्तियाँ निरस्त कर दी गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार।
गांधी सागर में मत्स्य ठेके
[मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास]
77. ( क्र. 1982 ) श्री चन्दरसिंह सिसौदिया : क्या राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) गांधी सागर मत्स्य पकड़ने का ठेका विगत पांच वर्षों में किस-किस कंपनी/फर्म को दिया गया व कितनी राशि में दिया गया? (ख) मत्स्य ठेका देने में किन-किन शर्तों पर करार किया गया तथा इससे प्रतिवर्ष कितनी आय विभाग को हुई? वर्षवार ब्यौरा दें। (ग) कितने स्थानों पर अवैध मत्स्य शिकार के मामले प्रकाश में आये? उन पर क्या कार्यवाही की गई? पूर्ण विवरण दें।
राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास ( श्री नारायण सिंह पंवार ) : (क) गांधी सागर में मत्स्य पकड़ने का ठेका नहीं किया जाता। जलाशय में मत्स्याखेट का कार्य पंजीकृत मत्स्य सहकारी समितियों के मछुओं द्वारा किया जाता है जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-अ अनुसार। (ख) गांधी सागर से उत्पादित मत्स्य का विक्रय अनुबंधग्रहिताओं के माध्यम से निष्पादित कराया जाता है वर्षवार आय की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-ब अनुसार। (ग) प्रश्नांश अवधि में गांधी सागर जलाशय में अवैधानिक मत्स्याखेट के कुल 39 प्रकरण दर्ज हुए जिसमें 12 पुलिस प्रकरण तथा 27 मत्स्य महासंघ अमले द्वारा नदीय अधिनियम 1972 के तहत कार्यवाही की गई।
शिशु रोग व स्त्रीरोग विशेषज्ञ की नियुक्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
78. ( क्र.
1983 ) श्री
चन्दरसिंह
सिसौदिया : क्या
उप मुख्यमंत्री, लोक
स्वास्थ्य
एवं चिकित्सा
शिक्षा महोदय
यह बताने की
कृपा करेंगे
कि (क) गरोठ
शासकीय
चिकित्सालय
में लम्बे समय
से शिशु रोग
विशेषज्ञ का
स्थान रिक्त
होने से तथा
स्त्रि रोग
विशेषज्ञ
नहीं होने से
नागरिकों को
लगभग 110
कि.मी. दूर
मंदसौर जाना
पड़ रहा हैं।
क्या शासन शीघ्र
इन विशेषज्ञ
की नियुक्ति
करेगा? यदि हाँ, तो कब
तक? (ख)
पद स्थापना
होने के
उपरांत भी
विशेषज्ञ का
यहां नहीं होने
का क्या कारण
हैं?
उप मुख्यमंत्री, लोक
स्वास्थ्य
एवं चिकित्सा
शिक्षा ( श्री
राजेन्द्र
शुक्ल ) : (क) सिविल
अस्पताल गरोठ
में शिशुरोग
विशेषज्ञ का
पद रिक्त है
तथा वर्तमान
में
स्त्रीरोग
विशेषज्ञ के
पद पर डॉ.
संगीता
पाटीदार को
पदस्थ किया
गया है।
पदपूर्ति एक
निरंतर
प्रक्रिया है, निश्चित
समयावधि बताई
जाना संभव
नहीं है। (ख) जिला
चिकित्सालय
मंदसौर में
स्त्रीरोग
विशेषज्ञ के
पद रिक्त होने
से डॉ. संगीता
पाटीदार की
ड्यूटी लगाई
गई थी। मुख्य
चिकित्सा एवं
स्वास्थ्य
अधिकारी के
आदेश दिनांक 01.03.2025
के द्वारा डॉ.
संगीता
पाटीदार को
मूल
पदस्थापना
स्थल सिविल अस्पताल
गरोठ हेतु
कार्यमुक्त
कर दिया गया
है।
मत्स्य पालन हेतु तालाबों का आवंटन
[मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास]
79. ( क्र. 1990 ) श्री मथुरालाल डामर : क्या राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासन की मत्स्य विकास एवं मत्स्य पालन की नीति क्या है तथा इसके क्या-क्या प्रावधान व नियम है? क्या इस नीति के अन्तर्गत सहकारी समिति एवं स्वयं सहायता समूहों को लाभ दिया जाता है? (ख) प्रश्नांश (क) सन्दर्भ में रतलाम जिले में कितनी संस्थाओं को मत्स्य पालन का कार्य दिया गया है? यदि हाँ, तो विगत 3 वर्षों की ग्रामवार सूची उपलब्ध करावें। (ग) क्या एक समिति अथवा समूह को 2 या 2 से अधिक तालाब मछली पालन हेतु आवंटित किये गये हैं? यदि हाँ, तो किस नीति के तहत? जानकारी देवें। (घ) रतलाम ग्रामीण विधानसभा में कौन-कौन से तालाब कौन-कौन सी पंजीकृत समिति अथवा समूह को कितनी अवधि के लिए आवंटित किये गये?
राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास ( श्री नारायण सिंह पंवार ) : (क) शासन द्वारा जारी की गई मत्स्य पालन नीति 2008 की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-अ अनुसार। (ख) रतलाम जिले में 15 मत्स्य सहकारी समितियों को मत्स्य पालन का कार्य दिया गया है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट -ब अनुसार। (ग) जी नही। (घ) रतलाम ग्रामीण विधान सभा में विभाग द्वारा आवंटित तालाब पंजीकृत समिति/समूह की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट- 'स' अनुसार।
निजी स्कूलों में गणवेश एवं किताबें खरीदने संबंधी मापदण्ड
[स्कूल शिक्षा]
80. ( क्र. 2024 ) श्री आतिफ आरिफ अकील : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश के निजी स्कूलों में अध्ययनरत् छात्र/छात्राओं के लिये यूनीफार्म और किताबें खरीदने के लिये क्या शासन द्वारा नियम/मापदण्ड निर्धारित किये गये हैं? जानकारी दें। (ख) क्या निजी स्कूलों संचालकों द्वारा यूनीफार्म/किताबें खरीदने के लिये निर्धारित मापदंड उपरान्त भी निजी स्कूल संचालकों द्वारा अभिभावकों को दुकान विशेष पर जाने को मजबूर किया जा रहा है? (ग) यदि हाँ, तो निजी स्कूल संचालकों द्वारा की जा रही मनमानी पर अंकुश लगाने के लिये शासन द्वारा प्रश्न दिनांक, कब-कब तथा क्या-क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-1 अनुसार है। (ख) जिला भोपाल एवं जिला जबलपुर में इस तरह की कुछ शिकायतें प्राप्त हुई थी। (ग) म.प्र. शासन स्कूल शिक्षा विभाग के परिपत्र क्रमांक 550-51/744/2018/20-3 दिनांक 01.04.2024 एवं क्रमांक 200/1992061/2024/20-3 दिनांक 27.04.2024 के माध्यम से संबंधितों के विरूद्ध आवश्यक कार्यवाही करने के समस्त जिला कलेक्टर को निर्देश दिये गये। जिला भोपाल में एक पुस्तक विक्रेता के विरूद्ध एवं जबलपुर में 12 स्कूलों एवं 02 पुस्तक विक्रेताओं के विरूद्ध एफ.आई.आर. दर्ज कराई गयी है। शेषांश का प्रश्न अपस्थित नहीं होता।
परिवहन विभाग में रिक्त पदों की पूर्ति
[परिवहन]
81. ( क्र. 2025 ) श्री आतिफ आरिफ अकील : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश परिवहन विभाग में प्रश्नांकित दिनांक की स्थिति में डिप्टी ट्रांसपोर्ट अधिकारी सहित क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी रीजनल ट्रांसपोर्ट इंस्पेक्टर ट्रांसपोर्ट सब इंस्पेक्टर के कितने-कितने पद कब-कब से रिक्त है? जिलेवार, पदवार रिक्त पदों की संख्या सहित बतावें। (ख) क्या स्टाफ की कमी के कारण क्षेत्रीय परिवहन कार्यालयों में ड्रायविंग लायसेंस तथा वाहन रजिस्ट्रेशन आदि के कार्य प्रभावित हो रहे है? यदि हाँ, तो रिक्त पदों की पूर्ति न किये जाने के क्या कारण हैं?
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) वर्तमान में 10 संभागीय डिप्टी ट्रांसपोर्ट अधिकारियों के स्वीकृत सभी 10 पद रिक्त हैं। शासन के आदेश दिनांक 30.12.2022 द्वारा श्री राजेश राठौड, अपर कलेक्टर जिला इंदौर को अपने वर्तमान कर्तव्यों के साथ-साथ संभागीय उप परिवहन आयुक्त का प्रभार अतिरिक्त रूप से सौंपा गया है। क्षेत्रीय परिवहन अधिकारियों के स्वीकृत 10 पदों में से 09 पद रिक्त हैं। ये रिक्तियॉं डिप्टी ट्रांसपोर्ट अधिकारी एवं क्षेत्रीय परिवहन अधिकारियों के समय-समय पर सेवानिवृत्त होने तथा लंबे समय से विभाग में पदोन्नति न हो पाने के कारण निर्मित हुई हैं। रीजनल ट्रांसपोर्ट इंस्पेक्टर के 62 पद एवं ट्रांसपोर्ट सब इंस्पेक्टर के 103 पद रिक्त हैं। रीजनल ट्रांसपोर्ट इंस्पेक्टर एवं ट्रांसपोर्ट सब इंस्पेक्टरों की जिलेवार पदस्थापना नहीं होती है। (ख) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
प्रोग्रामर की नियुक्ति
[स्कूल शिक्षा]
82. ( क्र. 2036 ) श्री चैन सिंह वरकड़े : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या यह सही है कि म.प्र. शासन स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश क्रमांक एफ-73-9/2002/20-2 दिनांक 20/05/2002 द्वारा 38 जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थानों में नवीन पद संरचना के तहत प्रोग्रामर के पद भी स्वीकृत किये गये थे? (ख) यदि हाँ, तो कितने जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण केन्द्रों में प्रोग्रामर की नियुक्ति की गई थी ये नियुक्तियां कुछ समय (पार्ट टाइम) के लिये थी या स्थाई थी? नियुक्ति दिनांक को क्या सभी प्रोग्रामर शासन द्वारा निर्धारित योग्यता रखते थे या नहीं स्पष्ट जानकारी दी जावे साथ ही प्रोग्रामर पद पर नियुक्ति आदेश की प्रमाणित छायाप्रति उपलब्ध करावें। (ग) क्या म.प्र. शासन स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश क्रमांक/एफ-44/35/09/20-2 भोपाल दिनांक 29/12/2009 द्वारा (क) में अंकित पद संरचना आदेश निरस्त कर दिया गया था इसके बाद भी क्या प्रोग्रामर पद से वेतन आहरित किया जाता रहा है। (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार प्रोग्रामर के पद समाप्ति दिनांक 29/12/2009 से किन-किन आहरण संवितरण अधिकारियों द्वारा कब से कब तक कितनी-कितनी राशि प्रोग्रामर पद से आहरित की गई है? क्रमांक, आहरण अधिकारी का नाम, माह, माह की सकल आहरित राशि आदि सहित जानकारी दी जाये।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) 13 जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थानों में प्रोग्रामर की नियुक्तियाँ की गई थी। उक्त नियुक्ति नियमित वेतनमान में की गई थी। नियुक्ति के समय जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डाइट) सतना, नरसिंहपुर, खण्डवा, उज्जैन, बजरंगगढ़ (गुना) पचमढ़ी (नर्मदापुरम), शहडोल, नौगांव (छतरपुर), के 08 प्रोग्रामर निर्धारित अर्हता रखते थे। शेष 05 (डाइट) मुरैना, राजगढ़, मण्डला, शिवपुरी एवं ग्वालियर के प्रोग्रामर द्वारा निर्धारित नियुक्ति आदेश की शर्तों में उल्लेखित योग्यता 01 वर्ष के अंदर प्राप्त कर ली गई थी। नियुक्त आदेश की प्रमाणित प्रति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''क'' पर है। (ग) जी हाँ। 09 जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थानों में प्रोग्रामर के पद से वेतन आहरित किया गया है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ख'' पर है।
30 जून को सेवानिवृत्त हुए शासकीय सेवकों को वेतनवृद्धि
[स्कूल शिक्षा]
83. ( क्र. 2060 ) श्री अनिल जैन कालूहेड़ा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या म.प्र. शासन के वित्त विभाग ने मान.उच्च न्यायालय द्वारा निर्णय प्रकरणों में 30 जून को सेवानिवृत्त हुए शासकीय सेवकों को 01 जुलाई से एक वेतनवृद्धि स्वीकृत करने के निर्देश जारी किये है? यदि हाँ, तो उज्जैन संभाग के स्कूल शिक्षा विभाग के अधीन ऐसे कितने और कौन-कौन कर्मचारी है जो मान. उच्च न्यायालय के निर्णय के उपरांत वेतन वृद्धि प्राप्त करने की पात्रता रखते हैं? (ख) उक्त प्रश्नांश (क) में अंकित कर्मचारियों को उनके वित्तीय लाभ में एरियर की ब्याज सहित राशि स्वीकृत करने संबंधी प्रकरण किस स्तर पर लंबित हैं? लंबित प्रकरण वाले कर्मचारियों को वेतन वृद्धि स्वीकृति के वित्तीय लाभ से कब तक लाभान्वित कर दिया जावेगा? (ग) प्रश्नांश (क) के अनुक्रम में उज्जैन संभाग के शिक्षा विभाग के अधीन वर्ष 2011 के बाद 30 जून को सेवानिवृत्त होने वाले कौन-कौन सेवानिवृत्त कर्मचारी हैं? तत्संबंधी जिला स्तर पर किन-किन कर्मचारियों के प्रकरणों का निराकरण लंबित है? नाम सहित प्रकरणवार पत्र व्यवहार की जानकारी उपल्ब्ध कराये। (घ) क्या उज्जैन संभाग के सेवानिवृत्त कर्मचारियों ने शिक्षा विभाग को जो अभ्यावेदन दिये है उनके निराकरण से संबंधित कार्यवाही से सेवानिवृत्त कर्मचारियों को अवगत नहीं कराया गया? ऐसे कौन-कौन आवेदक है? नैसर्गिक न्याय सिद्धांत तथा सुशासन के अनुपालन में उन्हें अवगत नहीं कराने का क्या कारण हैं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
शासकीय विद्यालयों में रिक्त पदों की पूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
84. ( क्र. 2075 ) श्री महेंद्र रामसिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र कोलारस में कौन-कौन से शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक/हाईस्कूल व हायर सेकेण्डरी स्कूल संचालित है? उक्त विद्यालयों में कौन-कौन से पद स्वीकृत है जानकारी पदवार, संस्थावार, संकुलवार पृथक-पृथक उपलब्ध करावें? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार उक्त स्कूलों में कौन-कौन से पद भरे व कौन-कौन से पद रिक्त है जानकारी संस्थावार, नामवार, पदवार, संकुलवार पृथक-पृथक उपलब्ध करावें? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) अनुसार रिक्त पदों की पूर्ति कब तक कर दी जावेगी बतावें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट' अनुसार। (ग) पद पूर्ति एक सतत् प्रकिया है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
विद्यालयों में जीर्णशीर्ण, जर्जर एवं भवनों की मरम्मत व निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
85. ( क्र. 2076 ) श्री महेंद्र रामसिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र कोलारस में कौन-कौन से शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक/हाईस्कूल व हायर सेकेण्डरी स्कूल भवन विहीन अथवा जीर्णशीर्ण व जर्जर एवं बाउण्ड्रीवॉल विहीन है? जानकारी संस्थावार, संकुलवार भवनों व बाउण्ड्रीवॉल की अद्यतन स्थिति अनुसार पृथक-पृथक उपलब्ध करावें? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार भवन विहीन अथवा जीर्णशीर्ण व जर्जर भवनों एवं बाउण्ड्रीवॉल के नवीन निमार्ण हेतु विभागीय स्तर पर क्या कोई कार्यवाही प्रचलन में है यदि हाँ, तो जानकारी संस्थावार, पदवार, संकुलवार पृथक-पृथक उपलब्ध करावें? उक्त निर्माण कार्य कब तक स्वीकृत किये जाकर निर्माण कार्य प्रारंभ कर दिया जावेगा? समय अवधि बतावें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन शासकीय हाई/हायर सेकेण्डरी स्कूलों के भवन संबंधी जानकारी निरंक है। कोई भी शासकीय हाई/हायर सेकेण्डरी स्कुल जीर्ण-शीर्ण व जर्जर नहीं है, भवन विहीन शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'एक' अनुसार एवं जर्जर भवनों की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'दो' अनुसार है। बाउण्ड्रीवाल विहीन शलाओं की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'तीन' अनुसार है। (ख) शासकीय हाई/हायर सेकेण्डरी स्कूलों में विद्यार्थी नामांकन के अनुसार अतिरिक्त आवश्यकता होने पर उपलब्ध बजट अनुसार अधोसंरचना के सुदृढ़ीकरण का कार्य किया जाता है। शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शाला में नवीन भवन एवं बाउण्ड्रीवाल निर्माण बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
नवीन सीएम राईज स्कूल की स्वीकृति
[स्कूल शिक्षा]
86. ( क्र. 2078 ) श्री महेंद्र रामसिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र कोलारस में वर्तमान में कौन-कौन से सीएम राईज विद्यालय संचालित है व उनमें कौन-कौन से पद स्वीकृत है स्वीकृत पदों के विरूद्ध कौन-कौन से पद भरे व कौन-कौन से पद रिक्त है जानकारी संस्थावार पृथक-पृथक उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या प्रश्नकर्ता द्वारा विधानसभा क्षेत्र कोलारस अन्तर्गत खतौरा व खरई में नवीन सीएम राईज स्कूल खोले जाने हेतु माननीय स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय को प्रस्ताव प्रेषित किया गया है यदि हाँ, तो उस पर वर्तमान की गयी कार्यवाही की अद्यतन जानकारी दें। (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार खतौरा व खरई में सीएम राईज स्कूल कब तक स्वीकृत कर दिये जावेंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) शासकीय सीएम राइज उ.मा.वि. बदरवास एवं शासकीय सीएम राइज उ.मा.वि. कोलारस संचालित है। शेष जानकारी संलग्न परिशिष्ट पर है। (ख) एवं (ग) नवीन सीएम राइज विद्यालय विकसित किया जाना बजट उपलब्धता एवं सक्षम स्वीकृति पर निर्भर करता है। अतएव समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
चंबल नदी में प्रदूषण
[जल संसाधन]
87. ( क्र.
2154 ) श्री
हरदीप सिंह
डंग : क्या
जल संसाधन
मंत्री महोदय
यह बताने की
कृपा करेंगे कि
(क) चंबल नदी
में कुल कितनी
नदियां मिलती
है नाम सहित
जानकारी
देवें? (ख) उक्त
नदी के आस-पास
कौन-कौन से
उद्योग
स्थापित है
जिसके द्वारा
केमिकल छोड़
के या अन्य
कारणों के
कारण चंबल नदी
का पानी दूषित
होता है विभाग
को ऐसे कितने
उद्योगों की
जानकारी है
बताएं? (ग) विगत
1
वर्ष में चंबल
नदी एवं चंबल
नदी में मिलने
वाली नदियों
में केमिकल
छोड़ने वालों
के विरूद्ध
प्रश्न
दिनांक तक
शासन/विभाग के
द्वारा क्या
कार्यवाही की
गई है जानकारी
देवें? (घ) क्या
वर्तमान में
चंबल नदी का
पानी दूषित है
या नहीं जांच
कर गुणवत्ता
रिपोर्ट की
जानकारी
उपलब्ध कराएं?
जल संसाधन
मंत्री ( श्री
तुलसीराम
सिलावट ) : (क) म.प्र.
प्रदूषण
नियंत्रण
बोर्ड की
जानकारी अनुसार
प्रदेश में
चम्बल नदी में
मुख्य रूप से 09
सहायक नदियाँ
मिलती हैं, जिनका विवरण
पुस्तकालय में
रखे परिशिष्ट के
प्रपत्र-''अ'' अनुसार
है। (ख)
चंबल नदी के
आसपास
स्थापित
उद्योगों
द्वारा उत्पादन
प्रक्रिया से
उत्पन्न होने
वाले रासायनिक
प्रदूषित जल
का उपचार
संयंत्र के
माध्यम से
शोधन कर परिसर
में
पुर्नउपयोग
करते हुए
शून्य निस्त्राव
की स्थिति
सुनिश्चित की
जाना प्रतिवेदित
है। अतः शेष
प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता है। (ग) प्रश्नांश
(ख) के उत्तर
के
परिप्रेक्ष्य
में शेष प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता है। (घ) प्रदूषण
नियंत्रण
बोर्ड द्वारा
मध्यप्रदेश
में प्रवाहित
चम्बल नदी की
जल गुणवत्ता
की जांच
प्राकृतिक जल
स्त्रोतों
हेतु
निर्धारित
मॉनिटरिंग
पैकेज अनुसार
नियमित रूप से
16
स्थलों पर की
जाना
प्रतिवेदित
है। विवरण पुस्तकालय में
रखे परिशिष्ट के
प्रपत्र-''ब'' अनुसार
है। जिसकी
जल गुणवत्ता
की श्रेणी
केन्द्रीय
प्रदूषण
नियंत्रण
बोर्ड द्वारा
समुचित उपयोग
अनुसार सतही
जल गुणवत्ता
हेतु
निर्धारित
मानक के आधार
पर विश्लेषण
परिणाम के
अनुसार पाई गई
वार्षिक औसत
श्रेणी विवरण पुस्तकालय में
रखे परिशिष्ट
के प्रपत्र–''स'' अनुसार
है।
चिकित्सा महाविद्यालयों में ब्लड बैंक की स्थापना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
88. ( क्र. 2194 ) श्री शैलेन्द्र कुमार जैन : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश में अब तक कितने शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय है एवं इनमें किन-किन महाविद्यालयों में स्वयं के ब्लड बैंक स्थापित है एवं कितनों में नहीं है? जिन महाविद्यालयों में ब्लड बैंक नहीं है वहाँ ब्लड बैंक स्थापित किये जाने की क्या कार्यवाही प्रचलन में है? विवरण सहित बताये। (ख) क्या सागर नगर स्थित बुन्देलखण्ड चिकित्सा महाविद्यालय को प्रारंभ हुये लगभग 16 वर्ष बीत जाने के बाद भी अब तक स्वयं के ब्लड बैंक की स्थापना नहीं हो पाई है, इसका क्या कारण है? (ग) क्या बुन्देलखण्ड चिकित्सा महाविद्यालय सागर में स्वयं का ब्लड बैंक स्थापित किये जाने का कोई प्रस्ताव शासन के समक्ष विचाराधीन है? यदि हाँ, तो अब तक की गई कार्यवाही से अवगत कराये।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ। वर्तमान में जिला अस्पताल में संचालित ब्लड बैंक से चिकित्सा महाविद्यालय सागर के मरीजों को सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है। चिकित्सा महाविद्यालय के पृथक ब्लड बैंक की स्थापना हेतु कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। (ग) जी हाँ। उत्तरांश 'ख' अनुसार।
सागर लाखा बंजारा झील में वाटर स्पोर्टस
[पर्यटन]
89. ( क्र.
2195 ) श्री
शैलेन्द्र
कुमार जैन : क्या
राज्य
मंत्री, पर्यटन
महोदय यह
बताने की कृपा
करेंगे कि (क) क्या
सागर नगर
स्थित अति
प्राचीन लाखा
बंजारा झील
में वाटर स्पोर्टस
संचालित किये
जाने की कोई
योजना प्रचलन
में है? यदि हाँ, तो इस
हेतु टूरिज्म
निगम/मंडल
द्वारा कितनी
राशि स्वीकृत
की गई है और इसके
अंतर्गत
कौन-कौन सी
गतिविधियाँ
संचालित की
जावेगी? विस्तृत
ब्यौरा
देवें। (ख) सागर
लाखा बंजारा
झील में वाटर
स्पोर्टस
संचालन कब तक
शुरू कर लिया
जायेगा?
राज्य
मंत्री, पर्यटन
( श्री
धर्मेन्द्र
भाव सिंह लोधी
) : (क)
लाखा
बंजारा लेक
संजय ड्राइव
जिला सागर में
राज्य शासन मद
अंतर्गत राशि
रु 196.00
लाख कि
प्रशासकीय
स्वीकृति
प्रदान की गई
है। प्राप्त
स्वीकृति के
अंतर्गत बोट
क्लब,
प्रशासनिक
भवन, स्लिप-वे, वेटिंग
एरिया एवं
अन्य विकास
कार्य हेतु
निविदा
ई-टेन्डरिंग
प्रणाली के
माध्यम से
आमंत्रित की
गई थी जिसे
स्वीकृत कर
एजेंसी को
स्वीकृति
पत्र जारी
किया जा चुका है।
(ख)
वर्तमान
में स्वीकृति
कार्य पूर्ण
होने पर वाटर
स्पोर्टस का
संचालन
प्रारंभ किया
जा सकता है।
चन्देरी के गलत इतिहास में संशोधन
[संस्कृति]
90. ( क्र. 2197 ) श्री जगन्नाथ सिंह रघुवंशी : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पर्यटन क्षेत्र चन्देरी का उल्लेख 16 महाजन पदों में क्यों नहीं किया जाता है? बुन्देल राजाओं द्वारा चन्देरी पर 300 वर्षों तक शासन किया गया है परन्तु चन्देरी के इतिहासकारों द्वारा चन्देरी के इतिहास में बुन्देल राजाओं का उल्लेख नहीं मिलता है। खिलजी मस्जिद, बूढ़ी चन्देरी, कटी घाटी, बादल महल इत्यादि के विषय में गलत जानकारी प्रस्तुत की है। श्री कृष्ण भगवान के इतिहास को अज्ञात बताया है लक्षमण जी की मूर्ति को ससुरी कहकर संबोधित किया है जो गलत है। साथ ही बाबर की लड़ाई को भी बहुत छोटी लड़ाई बताया गया है। जोहर की राख लगाकर राजपूत आपस में लड़ मरे, यह कहना भी गलत है। (ख) क्या शासन चन्देरी के इतिहास को प्रमाणिकता से लिखने हेतु पुरातत्व विभाग की टीम गठित कर दुबारा सही तरीके से चन्देरी का इतिहास लिखने हेतु कार्यवाही करेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों नहीं?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) महाजन पदों का कार्य विभाग के कार्यक्षेत्र में नहीं आता। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) उत्तरांश 'क' अनुसार।
स्पीड गवर्नर का नवीनीकरण
[परिवहन]
91. ( क्र. 2239 ) श्री राजेश कुमार शुक्ला : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन ने वर्ष 2016 से पूर्व निर्मित व्यावसायिक वाहनों में गति नियंत्रण हेतु स्पीड गवर्नर लगाना अनिवार्य किया है। (ख) क्या वाहनों में लगाए गए स्पीड गवर्नर का प्रमाण पत्र 01 वर्ष तक वैध होता है? क्या वाहन फिटनेस प्रमाणपत्र जारी करने के पूर्व स्पीड गवर्नर का नवीनीकरण कराया जाना अनिवार्य है, जिससे कंपनी यह सुनिश्चित करे कि स्पीड गवर्नर सही एवं चालू स्थिति में है। (ग) क्या वाहन फिटनेस प्रमाण पत्र प्राप्त करने हेतु वाहन किसी अन्य जिले में उपस्थित रहता है परंतु उनकी स्पीड गवर्नर लगाए जाने अथवा नवीनीकरण संबंधी प्रमाण पत्र अन्य जिले का प्रस्तुत करने पर भी फिटनेस प्रमाण पत्र जारी कर दिया जाता है? यह किस नियम से होता है? (घ) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में सागर संभाग की किन-किन जिलों में विगत 03 माह में वर्ष 2016 से पूर्व पंजीकृत व्यावसायिक वाहनों के फिटनेस प्रमाण पत्र बिना स्पीड गवर्नर नवीनीकरण प्रमाण पत्र के अथवा अन्य जिले के प्रमाण पत्र के आधार पर जारी किए गए हैं। जिलेवार विवरण प्रदाय करें।
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। वाहनों में लगे स्पीड गवर्नर के चालू हालत में होने की जांच फिटनेस प्रमाण-पत्र जारी करते समय की जाती है, इसके अतिरिक्त वाहन चैकिंग के दौरान वाहनों में नियमानुसार स्पीड गवर्नर चालू हालत में लगे होने की जांच की जाती है। (ग) केन्द्रीय मोटरयान नियम, 1988 के नियम 126 में विहित प्रावधानों के अनुसार निर्धारित मानक का गति नियंत्रक यंत्र जिसका टाईप एप्रूव्ल किया गया है, को संबंधित यंत्र निर्माता के प्रदेश में किसी भी डीलर से वाहन पर लगवाया जा सकता है तथा उक्त वाहन का प्रदेश में किसी भी जिले से फिटनेस प्रमाण-पत्र जारी कराया जा सकता है। (घ) सागर संभाग में वाहन में स्पीड गवर्नर यंत्र लगाये बिना फिटनेस जारी किये जाने संबंधी जानकारी निरंक है तथा प्रश्नांश (ख) अनुसार स्पीड गवर्नर नवीनीकरण प्रमाण-पत्र की आवश्यकता नहीं होने एवं प्रश्नांश (ग) अनुसार प्रदेश के किसी भी जिले से निर्धारित मानक का टाईप एप्रूव्ड यंत्र लगाये जा सकने के प्रावधानों के परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्नांश की जानकारी संधारित न होने के कारण दी जाना संभव नहीं है।
प्रदेश में रिक्त पदों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
92. ( क्र. 2259 ) श्री देवेन्द्र पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) स्कूल शिक्षा विभाग अंतर्गत प्रधानाध्यापक माध्यमिक शाला के कितने पद स्वीकृत हैं? इसमें से वर्तमान में कितने पद रिक्त हैं? (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित रिक्त पदों पर प्रभार देने की कार्यवाही क्या हैं विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गयी हैं? यदि नहीं, तो क्यों? प्रधानाध्यापक के पद पर उच्च पद प्रभार की कार्यवाही कब तक की जावेगी? समय अवधि बतावें। (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित रिक्त पदों पर उच्च पद प्रभार देने में विलंब करने वाले अधिकारियों के विरूद्ध विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की जावेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) वर्तमान में स्वीकृत पद संख्या 9764 एवं रिक्त पद संख्या 6809 है। (ख) भर्ती एवं पदोन्नति नियम, 2016 में संशोधन की कार्यवाही प्रचलन में है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) उत्तरांश ''ख'' अनुसार। प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
प्रतिनियुक्ति के प्रावधान
[स्कूल शिक्षा]
93. ( क्र. 2260 ) श्री देवेन्द्र पटेल : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान के अंतर्गत स्वीकृत एडीपीसी के पद पर कितने वर्ष की अवधि के लिए प्रतिनियुक्ति का प्रावधान हैं? भोपाल संभाग अंतर्गत कितने एडीपीसी प्रतिनियुक्ति पर वर्तमान में कार्यरत हैं एवं कितने वर्षों से प्रतिनियुक्ति पर है समयावधि बतावें? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित कार्यरत एडीपीसी में से कितने एडीपीसी को विभाग द्वारा हटाने के पश्चात पुन: एडीपीसी के पद पर नियुक्त किया गया है? यदि हाँ, तो क्यों? क्या विभाग द्वारा पुन: एडीपीसी के पद पर नियुक्त करने वाले अधिकारी के विरूद्ध कार्यवाही की गई यदि नहीं, तो क्यों? (ग) प्रतिनियुक्ति की अवधि पूर्ण होने एवं एक ही लोकसेवक की पुन: बार-बार एडीपीसी के पद पर पदस्थ किया गया हैं तो ऐसे लोकसेवकों की प्रतिनियुक्ति कब तक समाप्त कर दी जावेगी समयावधि बतावें? यदि नहीं, तो क्यों?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान के तहत एडीपीसी के पद पर प्रथमतः 02 वर्ष के लिये सेवाएं ली गई थी। विभागीय सहमति से वृद्धि का प्रावधान है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-01 अनुसार है। (ख) जी हाँ। जिला सीहोर में एडीपीसी प्रथम बार दिनांक 20.01.2016 से 22.01.2020 तक कार्यरत् रहे तथा पुनः 07.11.2020 से निरंतर एडीपीसी के पद पर पदस्थ हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-02 अनुसार। प्रशासकीय निर्णय के आधार पर कार्यवाही की गई। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) समग्र शिक्षा अभियान एक केन्द्र प्रवर्तित योजना है, जिसका संचालन स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा किया जाता है। इन योजनाओं में पदस्थ अधिकारी/कर्मचारी स्कूल शिक्षा विभाग के लोक सेवक है। स्कूल शिक्षा विभाग आवश्यकता होने पर केन्द्र प्रवर्तित योजनाओं के क्रियान्वयन हेतु पदस्थ कर सकता है। अतः शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है।
भृत्य के पद पर नियुक्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
94. ( क्र. 2321 ) श्री देवेन्द्र कुमार जैन : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या श्रीमंत राजमाता विजयाराजे सिंधिया चिकित्सा महाविद्यालय शिवपुरी द्वारा जारी विज्ञप्ति दिनांक 02.1.24 द्वारा गैर शिक्षकीय संवर्ग अंतर्गत भृत्य के रिक्त पद की पूर्ति हेतु एम.पी.ऑनलाईन से प्राप्त मेरिट सूची के आधार पर प्रावधिक पात्र अभ्यर्थियों के मूल दस्तावेजों का सत्यापन कराया गया था? यदि हाँ, तो भृत्य पद हेतु एम.पी.ऑनलाईन से प्राप्त समस्त अभ्यर्थियों की मेरिट सूची उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में दस्तावेज सत्यापन उपरांत मेरिट में पात्र सभी अभ्यर्थियों को विज्ञापित सभी 03 पदों पर नियुक्ति हेतु आदेश जारी कर दिये गए हैं? यदि हाँ, तो नियुक्ति आदेश की प्रतियां उपलब्ध करावें। यदि नहीं, तो किन-किन पदों के अभ्यर्थियों के नियुक्ति आदेश क्या जारी नहीं किये गए? सकारण जानकारी दें तथा शेष अभ्यर्थियों के नियुक्ति आदेश कब तक जारी किये जावेंगे? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के परिप्रेक्ष्य में क्या चिकित्सा महाविद्यालय शिवपुरी द्वारा विज्ञापित पदों में से मौखिक रूप कुछ पद डाइंग कैडर में दर्शाए जा रहे हैं? पदों को डाइंग कैडर घोषित करने संबंधी लिखित दस्तावेज उपलब्ध करावें तथा अवगत करावें कि डाइंग कैडर के रिक्त पदों पर भर्ती हेतु विज्ञापन जारी क्यों किया गया तथा विज्ञापित पदों का डाइंग कैडर के होना कैसे तय किया गया? सम्पूर्ण स्पष्ट जानकारी मय विवरण उपलब्ध करावें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-1 अनुसार है। (ख) विशेष जनजाति हेतु आरक्षित अनुसूचित जनजाति के एक पद का नियुक्ति आदेश जारी किया गया है, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-2 अनुसार है। शेष चतुर्थ श्रेणी के पदों को नियुक्ति के स्थान पर आउटसोर्स से भरने का प्रस्ताव परीक्षण में है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
यौन प्रताड़ना के मामले में की गई जांच एवं कार्यवाही
[संस्कृति]
95. ( क्र. 2322 ) श्री देवेन्द्र कुमार जैन : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या संस्कृति विभाग द्वारा संचालित राजा मानसिंह तोमर संगीत एवं कला विश्वविद्यालय ग्वालियर में वर्ष 2018 में तत्कालीन प्रभारी कुलपति एवं प्रमुख सचिव संस्कृति के निर्देश पर छात्राओं और शिक्षिकाओं के साथ यौन प्रताड़ना के मामलों की जांच के लिए समिति गठित की गई थी? (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में विश्वविद्यालय की आंतरिक परिवाद समिति की जांच में यौन प्रताड़ना के किन-किन दोषियों के खिलाफ कार्यवाही की अनुशंसा की गई थी? उक्त प्रकरण में विभाग द्वारा अभी तक क्या कार्रवाई की है? सम्पूर्ण जानकारी दें? यदि अब तक कोई कार्यवाही नहीं की गई है, तो क्या विभाग द्वारा भविष्य में इस मामले में कार्यवाही प्रस्तावित है?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। कार्यवाही प्रचलन में है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
एक ही जगह पदस्थ राजस्व अधिकारी/कर्मचारी की जानकारी
[राजस्व]
96. ( क्र.
2369 ) श्री
पन्नालाल
शाक्य : क्या
राजस्व
मंत्री महोदय
यह बताने की
कृपा करेंगे
कि (क) जिला
गुना में विगत
3
वर्ष एवं उससे
अधिक समय से
कौन-कौन से
राजस्व
अधिकारी एक ही
जिले में एवं
पदवारी एक ही
हल्का में
तथा सहायक
ग्रेड-03 एक ही शाखा
में पदस्थ
है। सारणीवार, पदवार
सूची देवें। (ख) प्रश्नांश
(क) की सूची
में से देखकर
बतावे कि
कितने
अधिकारी/कर्मचारी
एक ही जगह पर
कितने समय से
पदस्थ है। क्या
शासन 3
वर्ष एवं उससे
अधिक समय से
एक जगह पर
पदस्थ
अधिकारियों/कर्मचारियों
को हटायेगा
अथवा नहीं यदि
हाँ,
तो कब तक यदि
नहीं,
तो क्यों
नही?
राजस्व
मंत्री ( श्री
करण सिंह
वर्मा ) : (क)
जानकारी संलग्न
परिशिष्ट पर
है। (ख) गुना
जिला अंतर्गत 02 नायब
तहसीलदार, 161
पटवारी जिला
अंतर्गत
तहसीलों के एक
ही हल्का में
एवं 22
सहायक ग्रेड-3
कलेक्टर
कार्यालय/अनुविभागीय
अधिकारी
(राजस्व) कार्यालय
एवं तहसील
कार्यालयों
में विगत 03 वर्ष
से एक ही शाखा
में पदस्थ
होकर कार्यरत
हैं। शासन
द्वारा जारी
स्थानांतरण
नीति तथा
प्रशासकीय
एवं कार्य व्यवस्था
अनुसार
अधिकारी/कर्मचारियों
के स्थानांतरण
तथा शाखा
परिवर्तन
किये जाते हैं, समय-सीमा
बताया जाना
संभव नहीं है।
सब्सिडी प्राप्त तालाब एवं कियोस्क
[मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास]
97. ( क्र. 2370 ) श्री पन्नालाल शाक्य : क्या राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला गुना में मछली पालन हेतु कितने तालाब पट्टे पर दिये गये है? सभी हितग्राहियों/समूहों के नाम बतावें। इनमें से कितने समूहों द्वारा पट्टे पर प्राप्त तालाबों को ठेके पर दे दिये गये है एवं कितने तालाबों की रॉयल्टी प्रश्न दिनांक तक जमा नहीं की गई है? (ख) जिन समूहों द्वारा ठेके पर तालाब दिये गये है एवं जिनके द्वारा रॉयल्टी प्रश्न दिनांक तक जमा नहीं की गई है उनके पट्टे निरस्त करने की कार्यवाही कब तक की जायेगी? (ग) जिला गुना में सब्सिडी प्राप्त तालाब एवं कियोस्क के हितग्राहियों की विगत पांच वर्षों की सूची देवे। (घ) ऐसे कितने हितग्राही है जिन्होंने तालाब/कियोस्क का कार्य पूर्ण कर लिया है परन्तु उन्हें सब्सिडी अभी तक जारी नहीं की गई है? (ड.) इनमें से कितने तालाब एवं कियोस्क का निर्माण, अधिकारियों की मिली-भगत से धरातल पर न होकर केवल मात्र कागजों में है एवं सब्सिडी आहरण कर ली गई है? (च) शासन की निधि को भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ाने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्यवाही की गई है अथवा नहीं। यदि नहीं, तो कब तक कार्यवाही की जायेगी?
राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास ( श्री नारायण सिंह पंवार ) : (क) गुना जिले में 564 तालाब/जलाशयों पटटे पर आवंटित है जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-अ अनुसार। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जानकारी निरंक। (ग) जिला गुना में अनुदान प्राप्त तालाब/कियोस्क की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-ब अनुसार। (घ) से (च) जानकारी निरंक।
शमशान हेतु भूमि
[राजस्व]
98. ( क्र. 2406 ) श्री दिलीप सिंह परिहार : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नीमच विधानसभा में कितने ग्रामों में शासन स्तर पर शमशान हेतु भूमि उपलब्ध कराई गई है? (ख) प्रश्नांश (क) संदर्भित कितने ग्रामों में शमशान हेतु भूमि की मांग विभिन्न स्तर पर शासन से कब-कब, किस दिनांक को की गई है? इन ग्रामों में शमशान हेतु भूमि न देने के क्या कारण रहे? (ग) प्रश्नांश (क) और (ख) संदर्भित उक्त विधानसभा में ऐसी कितनी शासन द्वारा प्रदत्त शमशान भूमि है जिन पर अतिक्रमण किया जा चुका है? इसकी शिकायत कब-कब, किस व्यक्ति ने की? विभाग द्वारा इसकी जांच कब-कब की गई? क्या विभाग सम्पूर्ण शमशान भूमि के अतिक्रमण की जांच करवा कर इन्हें मुक्त करेगा? यदि हां, तो कब तक।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) नीमच विधानसभा के समस्त ग्रामो में शमशान हेतु भूमि उपलब्ध है। (ख) प्रश्नांश (क) संदर्भित नीमच विधानसभा में तहसील जीरन अंतर्गत ग्राम छाछखेडी स्थित भूमि सर्वे नंबर 592/1 रकबा 0.68 हैं. मेसे रकबा 0.30 हैं. भूमि शमशान हेतु न्यायालय अपर कलेक्टर नीमच के प्रकरण क्रमांक 09/अ-59/2024-25 आदेश दिनांक 03/03/2025 से आरक्षित की गई है। शेष प्रश्न की जानकारी निरंक है। (ग) नीमच विधानसभा क्षेत्र की जानकारी निरंक है।
शासकीय भूमि के पट्टे एवं आबादी भूमि
[राजस्व]
99. ( क्र. 2425 ) श्री धीरेन्द्र बहादुर सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बड़वारा विधानसभा अंतर्गत किन-किन खसरा नम्बरों की शासकीय/आबादी भूमि पर किस-किस ग्राम में किन-किन को आवासीय प्रयोजन हेतु पट्टे प्राप्त हैं और शासकीय भूमियों पर बिना अधिकारिता से अतिक्रमण कर कौन-कौन व्यक्ति/परिवार आवास निर्मितकर ग्रामवार निवासरत हैं? (ख) प्रश्नांश (क) क्या शासकीय भूमियों में बिना अधिकारिता से निवासरत परिवारों के विषय में ग्राम-पंचायतों एवं शासकीय विभागों द्वारा कोई जांच एवं इन परिवारों का परीक्षण एवं कार्यवाही की गई? हाँ, तो की गई कार्यवाही से अवगत कराए, यदि नहीं, तो क्यों, जबकि लगभग सभी ग्रामों में बाहर से आकर अनेकों परिवारों द्वारा शासकीय भूमियों पर खुलेआम अतिक्रमण किया जा रहा हैं? (ग) शासकीय भूमियों की सुरक्षा की ज़िम्मेदारी किन-किन विभागों और शासकीय सेवकों की होती हैं और अतिक्रमण न रोक पाने के जिम्मेदारों पर कोई कार्यवाही की जाती हैं? हाँ, तो किस प्रकार? नहीं तो क्यों? क्या शासन/विभाग इस विषय पर कोई नियम लागू कर संबंधितों को निर्देशित करेगा? (घ) प्रश्नांश (क) से (ग) के तहत क्या बड़वारा विधानसभा के ग्रामों में बाहर से आकर शासकीय भूमियों पर अतिक्रमण कर बिना अधिकारिता से निवासरत व्यक्तियों/परिवारों की जांच और इनका परीक्षण किए जाने की कार्यवाही की जायेगी? हाँ, तो किस प्रकार और कब तक? नहीं तो क्यों? जबकि शासकीय भूमि को सुरक्षित रखने और ग्रामों की सुरक्षा हेतु यह कार्यवाही किया जाना आवश्यक हैं?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) बड़वारा विधासभा अंतर्गत आवासीय प्रयोजन हेतु पट्टे की ग्रामवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'क' अनुसार है। बड़वारा विधानसभा अंतर्गत राजस्व न्यायालयों में दर्ज प्रकरणों के आधार पर शासकीय भूमि पर अतिक्रमण की ग्रामवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'ख' अनुसार है। (ख) जी हाँ। शासकीय भूमि पर अतिक्रमण की गई कार्यवाही की ग्रामवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'ख' अनुसार है। (ग) म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 संशोधित अधिनियम 2018 की धारा 248 के तहत कार्यवाही की अधिकारिता तहसीलदार को प्राप्त है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश 'ख' एवं 'ग' अनुसार।
मां जागेश्वरी माता मंदिर चन्देरी परिसर में जन सुविधाओं का विस्तार
[पर्यटन]
100. ( क्र. 2436 ) श्री जगन्नाथ सिंह रघुवंशी : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पर्यटन विभाग द्वारा ऑनलाईन टेंडर क्रमांक 117_STDC_376779_1/मां जागेश्वरी माता मंदिर चन्देरी परिसर में जन सुविधाओं का विस्तार एवं विकास कार्य (आंतरिक विद्युत कार्य सहित) राशि 950 लाख के कार्य हेतु निविदाएं आमंत्रित की गई थी। उक्त टेंडर हेतु कितनी निविदाएं प्राप्त हुई है। सूची देवें। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित टेंडर में प्राप्त निविदाओं का टेक्निकल सेक्शन में कितनी निविदाएं रिजेक्ट हुई एवं कितनी पास की गई है? क्या उक्त टेंडर को निरस्त कर दिया गया है? यदि हाँ, तो निरस्ती का कारण बतावें।
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। 08 निविदायें प्राप्त हुई है। (ख) उत्तरांश ''क'' के संदर्भ में उक्त निविदा की टेक्निकल निविदा नहीं खोली गयी है तथा उक्त निविदा को बी.ओ.क्यू. में परिवर्तन होने के कारण निरस्त कर दिया है।
फेक्ट्री के दूषित व केमिकल युक्त पानी को नदी में बहाने से दुष्प्रभाव
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
101. ( क्र. 2441 ) श्री निलेश पुसाराम उईके : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश के जिला-पांढुर्णा व सिवनी में स्थित चावल मिल/फेक्ट्री,ड्रायटेक प्रोसेस फेक्ट्री/कंपनी व सौंसर के अन्य औद्योगिक संस्था का वेस्टेज केमिकल युक्त दूषित जल व अन्य दूषित पदार्थ को जिले की नदी व अन्य स्थानों में बहाये जाने के कारण नदी का पानी दूषित होने, व्यक्तियों के स्वास्थ्य में कुप्रभाव पड़ने, पशु-पक्षियों व समीपी ग्रामों के निवासियों को संक्रमण बीमारी होने की संभावना के सम्बंध में कोई शिकायत/पत्र शासन/विभाग को प्राप्त हुआ? यदि हाँ, तो उस पर क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं कब तक कि जावेगी? (ख) क्या जिला सिवनी में एन.एच.एम. योजना अन्तर्गत आशा प्रशिक्षण कार्यक्रम के सम्बंध में जांच क्र/ एनएचएम/आशा/2024/4047 भोपाल,15.07.2024 की गई है? यदि हाँ, तो वह क्या है और उस जांच उपरांत पाए गए दोषियों पर क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं तो कब तक कि जावेगी? (ग) क्या जिला-पांढुर्णा व सिवनी में पदस्थ खाद्य व औषधि निरीक्षक 04 वर्षों से अधिक समय से पदस्थ हैं? यदि हाँ, वे कौन-कौन है उनके नाम व तिथि सहित जानकारी देवें। क्या जिला सिवनी में पदस्थ वरिष्ठ खाद्य व ओषधि निरीक्षक इसके पूर्व पदस्थापना स्थल में निलंबित हो चुके हैं व इनके विरूद्ध वर्तमान में अनियमितता एवं अन्य सम्बन्ध में कोई शिकायत/पत्र शासन/विभाग में प्राप्त हुआ है? यदि हाँ, उसमें क्या कार्यवाही की? यदि नहीं तो कब तक कि जावेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी हाँ। जांच हेतु राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन का निर्देश पत्र क्र./एन.एच.एम./ आशा/2024/4047 भोपाल, दिनांक 15.07.2024 की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। उस जांच का प्रतिवेदन क्षेत्रीय संचालक स्वास्थ्य सेवाएं, जबलपुर संभाग के पत्र क्र./शिका./24/19111 दिनांक 02/12/2024 से प्राप्त हुआ है जिसके निष्कर्ष अनुसार उक्त शिकायत में एन.एच.एम. द्वारा संचालित प्रशिक्षण के संबंध में व्ययों के भुगतान शासन के दिशा निर्देश तथा नियमानुसार होना एवं किसी गंभीर वित्तीय अनियमितता का नहीं होना पाया गया है। अतः शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। जिला पांढुर्णा एवं सिवनी में 04 वर्षों से अधिक समय से पदस्थ वरिष्ठ खाद्य व औषधि निरिक्षक की नामवार व तिथिवार की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। जी हाँ। खाद्य सुरक्षा अधिकारी श्रीमती सोनू तिवारी के विरूद्ध शिकायती पत्र दिनांक 28/02/2025 को कार्यालय आयुक्त, खाद्य सुरक्षा एवं नियंत्रक, खाद्य एवं औषधि प्रशासन को प्राप्त हुआ है। प्राप्त शिकायत परीक्षणाधीन है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
100 बिस्तरीय सिविल हॉस्पीटल की स्वीकृति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
102. ( क्र. 2466 ) श्री महेन्द्र केशरसिंह चौहान : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) माननीय मुख्यमंत्री जी द्वारा की गई घोषणा के पालन में विकासखण्ड भीमपुर में 100 बिस्तरीय सिविल अस्पताल की कब तक प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की जावेगी? (ख) क्या उक्त अस्पताल के लिये भूमि चिन्हित की गई है यदि हाँ तो कहाँ की गई है यदि नहीं, तो कब तक कर ली जावेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) प्रमुख सचिव म.प्र.शासन खनिज साधन विभाग मंत्रालय भोपाल के पत्र क्रमांक 421/2025/12/1 भोपाल दिनांक 28.01.2025 के अनुसार राज्य खनिज मद से भवन निर्माण की प्रशासकीय स्वीकृति की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। (ख) जी हाँ, ग्राम पंचायत आदर्श धनोरा के ग्राम हिडली की शासकीय भूमि जिसका खसरा न. 21 कुल रकबा 4.671 हेक्टेयर में से 01 हेक्टेयर का चयन किया गया है।
सागर जलाशय में हो रही गुणवत्ता विहीन कार्य एवं भ्रष्टाचार
[जल संसाधन]
103. ( क्र. 2487 ) श्री रजनीश हरवंश सिंह : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला सिवनी अंतर्गत केवलारी विधानसभा भोमा के पास स्थित सागर जलाशय में गुणवत्ताविहीन मरम्मत कार्य कराये जाने के कारण बांध का पानी नालों में बह गया जिससे कृषकों को पानी नहीं मिला क्या विभाग द्वारा दोषियों पर कोई कार्यवाही की गई? (ख) क्या विभाग द्वारा इस कार्य की जांच की गई और कब और कितनी राशि से मरम्मत कार्य कराया गया एवं उक्त बांध से कितने हेक्टेयर भूमि की सिंचाई हेतु पानी प्रदाय किया जाता था? (ग) बांध से पानी नहीं मिलने के कारण किसानों ने बोनी नहीं कर पाए जिससे उनकी आर्थिक स्थिति में अत्यधिक हानि हुई है क्या विभाग इसकी भरपाई करेगा। यदि हाँ, तो कब नहीं तो क्यों?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी नहीं, जिला सिवनी अंतर्गत केवलारी विधानसभा क्षेत्र भोमा के पास स्थित सागर जलाशय से पानी नालों में नहीं बहा अपितु गुणवत्ता पूर्ण मरम्मत कार्य कराए जाना एवं कृषकों को पूर्ण सिंचाई उपलब्ध कराई जाना प्रतिवेदित है। अत: शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता है। (ख) जी हां, दिनांक 30.09.2024 को विद्युत यांत्रिकीय इकाई द्वारा स्थल का परीक्षण किया गया तथा गेट से पानी के रिसाव को बंद किए जाने हेतु कुशल गोताखोरों से आवश्यक मरम्मत कार्य रू.83,880/- का कराया जाना प्रतिवेदित है। बांध से औसतन 1120 हेक्टेयर खरीफ एवं 617 हेक्टेयर रबी कुल 1737 हेक्टेयर क्षेत्र में सिंचाई हेतु पानी प्रदाय किया जाता था। (ग) जी नही, इस वर्ष बांध से कृषकों को 1120 हेक्टेयर खरीफ क्षेत्र में पानी प्रदाय किया जाना प्रतिवेदित है तथा बांध में उपलब्ध पानी के अनुसार रबी फसल में 800 हेक्टेयर रकबे में पलेवा हेतु एक पानी प्रदाय किया जाना प्रतिवेदित है। अतः कृषकों को आर्थिक हानि होने का प्रश्न ही नहीं है, अत: शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता है।
सालोन-बी को टप्पा तहसील बनाया जाना
[राजस्व]
104. ( क्र. 2496 ) श्री राजेन्द्र भारती : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या माननीय मुख्यमंत्री जी द्वारा सालोन-बी को टप्पा/तहसील भी बनाये जाने के संबंध में घोषणा की गई थी? यदि हाँ, तो क्या दतिया जिले की भांडेर तहसील अंतर्गत ग्राम सालोन-बी को दिनांक 25 फरवरी, 2022 को म.प्र. शासन द्वारा टप्पा तहसील का दर्जा दिया गया था? यदि हाँ, तो कृपया आदेश सहित विवरण प्रदान करें। (ख) क्या टप्पा तहसील सालोन-बी का उद्घाटन तत्कालीन क्षेत्रीय भांडेर विधायक एवं अनुभाग के अधिकारियों द्वारा किया गया था? यदि हाँ, तो कृपया बतायें कि क्या उक्त टप्पा तहसील सालोन बी वर्तमान में संचालित एवं क्रियाशील है यदि हाँ, तो कहां और किस स्थान पर? कृपया वर्तमान में संचालित टप्पा तहसील कार्यालय का पता बतायें। यदि नहीं, तो क्यों? (ग) उक्त टप्पा तहसील घोषणा एवं उद्घाटन पश्चात् अभी तक प्रारंभ क्यों नहीं हो सकी? प्रारंभ न होने के लिये कौन-कौन अधिकारी जिम्मेदार है? विवरण प्रदान करें। क्या टप्पा तहसील सालोन बी प्रारंभ होगी? यदि हाँ, तो कब तक यदि नहीं, तो क्यों? (घ) दतिया जिला में ऐसे कितने डिप्टी कलेक्टर है जो विगत तीन वर्ष की अवधि से अधिक समय से पदस्थ रहते हुए गंभीर भ्रष्टाचार एवं अनियमितताओं की शिकायतें होने के बावजूद सामान्य प्रशासन विभाग की स्थानांतरण नीति क्रमांक/एफ6-1/2021/एक/9 दिनांक 24 जून, 2021 के बिन्दु क्रमांक 17 के अंतर्गत होने के पश्चात भी एक ही जिले में पदस्थ रखने की मजबूरी क्या है? कृपया कारण सहित विवरण दें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) मुख्यमंत्री घोषणा क्र. 4851 दिनांक 28.07.2018 ग्राम सालोन बी को टप्पा तहसील बनाये जाने हेतु घोषणा की गई थी। जी नहीं। कार्यवाही प्रचलित है शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) एवं (ग) उत्तरांश (क) के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जिला दतिया में 01 संयुक्त कलेक्टर 03 वर्ष से अधिक अवधि से पदस्थ है। शिकायत तथा जांच उपरांत गुणदोष के आधार पर ही स्थानांतरण किया जा सकता है।
स्कूलों में भवन निर्माण कार्य की स्वीकृति
[स्कूल शिक्षा]
105. ( क्र. 2511 ) श्री सोहनलाल बाल्मीक : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विकासखण्ड परासिया के अंतर्गत ऐसे कितने प्राथमिक शाला, माध्यमिक शाला, हाई स्कूल एवं हायर सेकेंडरी स्कूल है, जिनके लिए शासन द्वारा पूर्व में भवन (बिल्डिंग) निर्माण कार्य की स्वीकृति प्रदान की जा चुकी है और वे स्वयं के भवन में संचालित हो रहे है, स्कूलों की सूची सहित जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) विकासखण्ड परासिया के अंतर्गत ऐसे कितने प्राथमिक शाला, माध्यमिक शाला, हाई स्कूल एवं हायर सेकेंडरी स्कूल है, जहां स्वयं का भवन (बिल्डिंग) उपलब्ध नहीं है? स्कूलों की सूची सहित जानकारी उपलब्ध करायें। (ग) प्रश्नांश (ख) के अनुसार जिन प्राथमिक शाला, माध्यमिक शाला, हाई स्कूल एवं हायर सेकेंडरी स्कूलों में स्वयं के भवन नहीं है, ऐसे सभी भवन विहीन प्राथमिक शाला, माध्यमिक शाला, हाई स्कूल एवं हायर सेकेंडरी स्कूलों में भवन (बिल्डिंग) निर्माण कार्य कराये जाने हेतु कार्यवाही कर, राज्य सरकार शासन द्वारा कब तक स्वीकृति प्रदान कर दी जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'एक' अनुसार है। (ख) शासकीय माध्यमिक एवं हाई स्कूल के उन्नयन उपरांत माध्यमिक शालाओं एवं शासकीय हाई स्कूल के भवन ही क्रमशः हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्डरी स्कूल के भवन है। विद्यार्थी नामांकन के अनुसार अतिरिक्त आवश्यकता होने पर उपलब्ध बजट अनुसार अधोसंरचना सुदृढ़ीकरण कार्य किया जाता है। अतः शेषांश उद्भूत नहीं होता। भवन विहीन शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'दो' अनुसार है। (ग) विद्यार्थी नामांकन के अनुसार अतिरिक्त आवश्यकता होने पर उपलब्ध बजट अनुसार अधोसंरचना सुदृढ़ीकरण कार्य किया जाता है। अधोसंरचना सुदृढ़ीकरण कार्य बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। अतः निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
मंदिर के जीर्णोंद्धार हेतु राशि की स्वीकृति
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
106. ( क्र. 2512 ) श्री भंवर सिंह शेखावत : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) किला स्थित श्री चिन्तामण गणेश मंदिर जीर्णोद्धार कार्य का प्रस्ताव राशि 49.79 लाख की स्वीकृति हेतु शासन स्तर पर लंबित है, उक्त स्वीकृति के संबंध में उप सचिव धार्मिक न्यास एवं धर्मस्व विभाग म.प्र.शा. भोपाल द्वारा पत्र क्र. 166/2020-21/68 भोपाल दिनांक 31/01/2023 एवं पृ.क्र. 1409/2226454/2024/68 भोपाल दिनांक 28/08/2024 अनुसार कलेक्टर धार को जारी कर उल्लेखित मंदिर के संबंध में जानकारी चाही गई थी। (ख) प्रश्नांश (क) के सन्दर्भ में उल्लेखित मंदिर के जीर्णोद्धार कार्य की स्वीकृति कब होगी? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के सन्दर्भ में मंदिर जीर्णोद्धार कार्य समय पर न होने के कारण भूमि का क्षरण हो रहा है तथा मंदिर भूमि के पश्चिम तथा उत्तरी हिस्से में अतिक्रमणकर्ताओं द्वारा कच्चा एवं पक्का निर्माण कर अतिक्रमण किया जा रहा है। क्या मंदिर भूमि अतिक्रमणकारियों से मुक्त होगी? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं तो क्यों? (घ) ग्राम कटलावदा में श्रीराम मंदिर जीर्णोद्धार कार्य हेतु कलेक्टर महोदय जिला धार के पत्र क्रमांक 3933/मॉफी/2020/धार दिनांक 17/06/2020 के अनुसार राशि 12.95 लाख आवंटित की गई थी किन्तु राशि प्रश्न दिनांक तक निर्माण एजेंसी को प्रदाय नहीं की गई है, क्यों? राशि कब प्रदाय की जावेगी?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जी हाँ। (ख) शासन स्तर पर प्रस्ताव अप्राप्त है। शेष प्रश्न उदभूत नहीं होता। (ग) श्री चिन्तामन गणेश मंदिर के भूमि स्वामी स्वत्व पर कोई भूमि दर्ज नहीं है। शेष प्रश्न उदभूत नहीं होता। (घ) विभाग के आदेश क्र. एफ 3-48/2018/68 भोपाल दिनांक 12/06/2020 द्वारा श्रीराम मंदिर कटलावदा तहसील बदनावर जिला धार हेतु राशि रूपये 25.89 की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की गई थी। निर्माण एजेन्सी द्वारा तत्समय समय-सीमा में राशि का उपयोग नहीं किया गया। वर्तमान में राशि रूपये 25.89 के पुर्नआवंटन हेतु प्रस्ताव/पत्र निर्माण एजेन्सी के माध्यम से प्राप्त हुआ है। प्रस्ताव के परीक्षण उपरांत बजट की उपलब्धता के आधार पर राशि जारी की जाती है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
पर्यटन स्थलों में सुविधाएं
[पर्यटन]
107. ( क्र. 2515 ) डॉ. राजेन्द्र पाण्डेय : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रश्नकर्ता द्वारा विभिन्न पत्रों एवं विधानसभा के विभिन्न सत्रों में क्षेत्रीय पर्यटन स्थलों पर पर्यटकों की मूलभूत आवश्यकताओं के विभिन्न निर्माण कार्यों एवं स्थलों के सौन्दर्यीकरण किए जाने हेतु निरंतर आग्रह किया है? (ख) यदि हाँ, तो क्या विभाग के विगत वर्षों में दिए गए निर्देश/ आदेश के माध्यम से जावरा एवं पिपलोदा तहसील अंतर्गत कुछ पर्यटक स्थलों को चिन्हित कर वहां पर सुविधाएं दिए जाने हेतु प्रस्ताव तैयार किया जाकर उस पर कार्यवाही प्रस्तावित की गयी है? (ग) यदि हाँ, तो क्या जावरा तहसील अंतर्गत मनकामेश्वर (मिंडाजी) त्रिवेणी स्थल, प्राचीन स्थल कांकरवा एवं पहाड़ी स्थल नंदावता के साथ ही पिपलोदा तहसील अंतर्गत पहाड़ी पर्यटन स्थल सुजापुर, पहाड़ी पर्यटन स्थल रोग्या देवी (मामटखेड़ा), पहाड़ी स्थल पिंगराला इत्यादि स्थलों पर वर्ष भर में हजारों पर्यटकों के आवागमन होने से मूलभूत आवश्यकताओं के कार्यों की मांग भी निरंतर विगत कई वर्षों से की जा रही है? (घ) यदि हाँ, तो विभाग द्वारा क्या इसे सिंहस्थ मद बजट अंतर्गत अथवा विभागीय पर्यटन बजट अंतर्गत उपरोक्तानुसार अत्यंत महत्वपूर्ण स्थलों के विकास कार्यों हेतु बजट स्वीकृति दी जा सकेगी? यदि हां, तो कब तक?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) से (ग) जी हाँ। (घ) कार्य के महत्व एवं आवश्यकता तथा बजट की उपलब्धता के आधार पर कार्य स्वीकृत किय जाते है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
धार्मिक स्थलों का जीर्णोद्धार
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
108. ( क्र. 2516 ) डॉ. राजेन्द्र पाण्डेय : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विभाग से जावरा एवं पिपलोदा तहसील अंतर्गत विभिन्न धार्मिक स्थलों के जीर्णोद्धार एवं रख-रखाव किए जाने हेतु विगत वर्षों में लगातार मांग की जाती रही है? (ख) यदि हाँ, तो वर्ष 2018-19 से लेकर प्रश्न दिनांक तक उपरोक्त उल्लेखित दोनों तहसीलों के अंतर्गत किन-किन धार्मिक स्थलों के जीर्णोद्धार एवं रख-रखाव हेतु वर्षवार कितनी-कितनी राशि स्वीकृत की जाकर कितना व्यय हुआ? वर्षवार जानकारी दें। (ग) प्रश्नांश (ख) उल्लेखित दोनों तहसीलों के अंतर्गत शासनाधीन कितने धार्मिक स्थल किन-किन स्थलों पर होकर उन स्थलों पर कितने-कितने पुजारी नियुक्त होकर उन्हें मानदेय कितना-कितना दिया जा रहा है? वार्डवार, ग्रामवार जानकारी दें। (घ) प्रश्नांश (ख) उल्लेखित स्थलों से संलग्न कुल कितनी-कितनी भूमियां होकर उनकी नीलामी से वर्षवार कितनी-कितनी राशि प्राप्त हो रही, साथ ही धार्मिक स्थलों से धर्मालुओं द्वारा दान की गई नगद एवं वस्तु राशि कितनी-कितनी प्राप्त हो रही? वर्षवार जानकारी दें। साथ ही किन-किन स्थलों की समितियां गठित होकर कब से कार्यरत हैं, कितनी समितियां अगठित होकर निष्क्रिय हैं एवं कितनी समितियां में कितने पद रिक्त हैं?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
प्रतिनियुक्ति के नियमों का पालन
[स्कूल शिक्षा]
109. ( क्र. 2549 ) श्री योगेन्द्र सिंह (बाबा) : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रतिनियुक्ति के क्या नियम हैं? एक व्यक्ति को कितने समय के लिये आदाता-प्रदाता विभाग द्वारा अनापत्ति प्रमाण-पत्र प्रतिनियुक्ति के लिये कितने-कितने वर्षों के लिये प्रदान किये जा सकते हैं? (ख) माध्यमिक शिक्षा मण्डल में प्रतिनियुक्ति के नियमों का भ्रष्टाचार के कारण उल्लंघन करने पर तथा नियम विरूद्ध बार-बार अनापत्ति प्रमाण-पत्र देने पर अनापत्ति प्रमाण-पत्र निरस्त करके विगत 25 वर्षों से प्रतिनियुक्ति समाप्त की जायेगी तथा दोषियों के विरूद्ध कार्यवाही की जावेगी, स्पष्ट करें। (ग) आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय द्वारा भी प्रतिनियुक्ति के नियमों का स्पष्ट उल्लंघन करके प्रदान की गई अनापत्ति प्रमाण-पत्र निरस्त करके विगत 25 वर्षों से प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत व्याख्याता/उप प्राचार्यों की प्रतिनियुक्ति समाप्त करके प्रतिनियुक्ति के नियमों का पालन करने के आदेश जारी किये जावेंगे तथा दोषियों के विरूद्ध अनापत्ति प्रमाण-पत्र जारी करेन के संबंध में कार्यवाही की जावेगी? (घ) यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। एक व्यक्ति को आदाता-प्रदाता विभाग द्वारा अनापत्ति प्रमाण-पत्र आवश्यकतानुसार प्रदाय किये जाते है। (ख) माध्यमिक शिक्षा मण्डल में प्रतिनियुक्ति के नियमों का भ्रष्टाचार के कारण उल्लंघन संबंधित कोई शिकायत या प्रकरण प्राप्त होना नहीं पाया गया है। प्रतिनियुक्ति के प्रकरणों में शासन के दिशा निर्देशों/नियमों का सम्यक रुप से पालन कर प्रतिनियुक्ति की कार्यवाही की जाती है। अतः शेषांश का प्रश्न अपस्थित नहीं होता। (ग) एवं (घ) प्रश्नांश (ख) उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
प्रदेश के मंदिरों के पुजारियों का मानदेय
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
110. ( क्र. 2561 ) श्री हेमंत सत्यदेव कटारे : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्तमान में प्रदेश के किन-किन मंदिरों की पूजा में संलग्न पुजारियों को सेवापूजा, भोग-प्रसाद, उत्सव, पोशाक व पूजापाठ हेतु शासन की ओर से कितनी राशि का प्रतिमाह मानदेय भुगतान किया जा रहा हैं? क्या प्रदेश के मंदिर पुजारी संघ की ओर से मानदेय में वृद्धि एवं अन्य मांगों हेतु शासन को ज्ञापन प्रस्तुत किया गया हैं? यदि हाँ, तो कौन-कौन सी मांग उठायी गयी तथा उन पर शासन द्वारा क्या निर्णय लिया गया? (ख) शासकीय अभिलेख अनुसार वर्तमान में कितने पुजारी हैं? जिलेवार जानकारी जिसमें पुजारी का नाम, पता, मंदिर जहां पुजारी नियुक्त हैं एवं प्राप्त हो रही मानदेय राशि आदि उपलब्ध करायी जाये। (ग) क्या अन्य राज्यों की भांति प्रदेश के पुजारियों के भी मानदेय में वृद्धि की जायेगी? पूर्ण जानकारी दी जाये साथ ही प्रदेश के समस्त गांवों में स्थित सभी मंदिरों के पुजारियों को भी शासन की ओर से मानदेय का भुगतान किया जायेगा? यदि हाँ, तो कब तक? (घ) क्या प्रदेश में मंदिरों के रख-रखाव उनसे संलग्न भूमि आदि की व्यवस्था हेतु वर्तमान में प्रशासकीय अधिकारियों को प्रशासक बनाये जाने के स्थान पर शासन धार्मिक संस्थाओं/मंडलों को मंदिरों का सनातन संस्कृति अनुसार संचालन हेतु दायित्व सौंपने पर विचार करेगा?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
शासकीय घोषित भूमि को निजी भूमि में दर्ज
[राजस्व]
111. ( क्र. 2562 ) श्री हेमंत सत्यदेव कटारे : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मौजा मौ जिला भिण्ड के सर्वें नं. 3168/1, 3184/1, 3162 एवं 3147 की भूमि की नोईयत की जानकारी अभिलेख अनुसार संवत 2010 से वर्तमान तक उक्त भूमि शासकीय अथवा निजी थी? उपलब्ध करायी जाये। (ख) क्या तहसीलदार मौ के आदेश प्रकरण क्र. 00099/0-121/2024-25 में दिनांक 24.06.2024 द्वारा मौजा मौ जिला भिण्ड के सर्वें नं. 3168/1, 3184/1, 3162 एवं 3147 की भूमि को शासकीय भूमि इन्द्राज किया गया था? (ग) क्या उक्त शासकीय भूमि इन्द्राज करने संबंध प्रकरण में निगरानी प्रस्तुत होने पर प्रकरण में बिना जांच कराये व एकपक्षीय कार्यवाही कर आनन-फानन में तहसीलदार मौ के आदेश को अपास्त किया गया था? यदि हाँ, तो किन परिस्थिति में बताएं। (घ) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित सर्वें क्र. की शासकीय भूमि को निजी भूमि दर्ज होने के तुरंत बाद भू-माफियाओं द्वारा भूमि पर भू-खण्ड विकसित कर विक्रय कर दी गई हैं? यदि हाँ, तो क्या इस संबंध में शिकायत शासन को प्राप्त हुई? यदि हाँ, तो कब-कब व उन पर क्या कार्यवाही की गयी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) मौजा मौ जिला भिण्ड के सर्वे नं. 3168/1,3184/1,3162 एवं 3147 की भूमि की संवत 2010 (वर्ष 1953) से 2014 एवं संवत 2015 से 2017 तक के उपलब्ध अभिलेख अनुसार भूमि की नोइयत चरनोई थी। संवत् 2018 से 2019 एवं संवत 2020 से 2024 के उपलब्ध अभिलेख अनुसार सर्वे क्रमांक 3162 परशुराम पुत्र कुंदन जाति बढ़ई निवासी मौ के नाम प्रकरण कमांक 152/60X162 आज्ञा दिनांक 17.07.61 एवं सर्वे कमांक 3147,3168/1,3184/1 गुही पुत्र धर्मराय जाति कोरी निवासी मौ के नाम प्रकरण क्रमांक 152152/60X162 आज्ञा दिनांक 17.07.61 से अंकित है। संवत 2026 से 2030 में सर्वे क्रमांक 3147,3168/1,3184/1 बसंत कुमार, प्रकाशचंद्र, जगदीशचंद्र, राकेशचंद्र पुत्रगण गुलाबचंद्र जाति वैश्य निवासी लोहारपुरा के नाम व सर्वे क्रमांक 3162 परसुराम पुत्र कुदंन जाति बढ़ई निवासी मौ के नाम उपलब्ध अभिलेख अनुसार अंकित है। संवत 2031 से 2035 में सर्वे क्रमांक 3147,3168/1,3184/1 बसंत कुमार, प्रकाशचंद्र, जगदीशचंद्र, राकेशचंद्र पुत्रगण गुलाबचंद्र जाति वैश्य निवासी लोहारपुरा के नाम व सर्वे क्रमांक 3162 परसुराम पुत्र कुदंन जाति बढ़ई निवासी मौ के नाम उपलब्ध अभिलेख अनुसार अंकित है। संवत 2036 से 2040 में सर्वे क्रमांक 3147,3168/1,3184/1 बसंत कुमार, प्रकाशचंद्र, जगदीशचंद्र, राकेशचंद्र पुत्रगण गुलाबचंद्र जाति वैश्य निवासी लोहारपुरा के नाम व सर्वे क्रमांक 3162 परसुराम पुत्र कुदंन जाति बढ़ई निवासी मौ के नाम उपलब्ध अभिलेख अनुसार अंकित है। संवत 2041 से 2045 सर्वे क्रमांक 3147,3168/1,3184/1, पंजी क्रमांक 73/17/09/85 दिनांक 07.10.85 से बसंत कुमार आदि के स्थान पर प्रबोध कुमार पुत्र शांतिकुमार का नाम उपलब्ध अभिलेख अनुसार अंकित है तथा सर्वे क्रमांक 3162 परसुराम पुत्र कुदंन जाति बढ़ई निवासो मौ के नाम उपलब्ध अभिलेख अनुसार अंकित है। सर्वे क्रमांक 3162 विक्रय पत्र क्रमांक 956 दिनांक 19.06.91 से विक्रेता परसुराम पुत्र कुंदन के स्थान पर प्रबोध कुमार पुत्र शांति कुमार के नाम उपलब्ध अभिलेख अनुसार विक्रय किया गया है। इस प्रकार तहसीलदार मौ के प्रकरण क्रमांक 0009/बी-121/2024-25 में पारित आदेश के अमल दिनांक 24.06.2024 से पूर्व उक्त भूमि उपरोक्तानुसार भूमिस्वामियों के नाम दर्ज होकर निजी भूमि रही है। (ख) जी हाँ। तहसीलदार मौ द्वारा अपनी अधिकारिता से बाहर जाकर प्रकरण क्र. 0009/बी-121/2024-25 द्वारा मौजा मौ जिला भिण्ड के सर्वें नं. 3168/1, 3184/1, 3162 एवं 3147 को शासकीय दर्ज किया गया था। (ग) आवेदकगण तिलक सिंह आदि समस्त कृषक एवं निवासीगण मौ द्वारा इस आशय का आवेदन कलेक्टर न्यायालय में पेश किया गया कि मौजा मौ स्थित सर्वे क्रमांक 3168/1, 3184/1, 3162, 3147 पर प्रमोद कुमार ने अपने नाम से फर्जी इन्द्राज करा लिया है। प्रस्तुत आवेदन को न्यायालय में निगरानी मद में दर्ज करते हुये प्रकरण क्रमांक 0019/स्व. निगरानी/2024-25 पर संचालित किया गया। प्रकरण में प्रमोद जैन द्वारा उपस्थित होकर जबाव प्रस्तुत कर निवेदन किया गया कि उनके सर्वे नंबरों को अधीनस्थ न्यायालय द्वारा षडयंत्र कर शासकीय घोषित किया गया है। अधीनस्थ न्यायालय का अभिलेख प्रकरण क्रमांक 0009/बी-121/2024-25 तलब कर प्रकरण की जांच की गयी जिसमें यह पाया गया कि तहसीलदार मौ द्वारा प्रकरण बी-121 में दर्ज किया गया है जबकि रिकार्ड सुधार हेतु प्रकरण अ-6 (अ) में दर्ज किया जाता है, प्रकरण को आर.सी.एम.एस. पोर्टल पर देखने पर प्रकरण 26.06.2024 को अगली सुनवाई हेतु नियत था, हल्का पटवारी द्वारा बयान दिया गया कि अधीनस्थ न्यायालय के पीठासीन अधिकारी ने दबाव डालकर रिकार्ड में अमल दिनांक 24.06.2024 को कराया है। अधीनस्थ न्यायालय के रीडर ने भी प्रकरण दिनांक 24.06.2024 को पीठासीन अधिकारी माला शर्मा द्वारा लौटाया जाना बताया गया, माला शर्मा दिनांक 24.06.2024 को वृत्त मौ के प्रभार में नहीं थी क्योंकि उनको कार्यालयीन आदेश क्रमांक/2ख/स्था./2024/5779, भिण्ड दिनांक 13.06.2024 से वृत्त देहगांव तहसील मौ में कार्य करने हेतु आदेशित किया गया था। ऐसी स्थिति में पटवारी पर जोर डालकर आई.डी. से अमल कराया गया है साथ ही अधीनस्थ न्यायालय ने वर्तमान धारकों ने जिस विक्रेता से भूमि क्रय की है बसंत कुमार उनको भी पक्षकार नहीं बनाया गया है। म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 यथा संशोधित 2018 की धारा 115 निम्नानुसार है-''115.भू-अभिलेख में गलत या अशुद्ध प्रविष्टि का शुद्धिकरण :- (1) उपखण्ड अधिकारी स्वप्रेरणा से या व्यथित व्यक्ति के आवेदन पर, भू-अधिकार पुस्तिका तथा अधिकार अभिलेख को छोड़कर धारा 114 के अधीन तैयार किये गए भू-अभिलेखों में अप्राधिकृत प्रविष्टियों को सम्मिलित करते हुए गलत या अशुद्ध प्रविष्टि को, ऐसी जांच जैसी कि वह उचित समझे करने के पश्चात् शुद्ध कर सकेगा और ऐसी शुद्धियां उसके द्वारा अधिप्रमाणित की जाएंगी : परन्तु कलेक्टर की लिखित मंजूरी के बिना पांच वर्ष की कालावधि के पूर्व की किसी प्रविष्टि को शुद्ध करने की कार्रवाई प्रारंभ नहीं की जाएगी। (2) उपधारा (1) के अधीन कोई आदेश- संबंधित तहसीलदार से लिखित रिपोर्ट प्राप्त किये और भी हितबद्ध पक्षकारों को सुनवाई का अवसर दिए, बिना पारित नहीं किया जाएगा : परन्तु यदि सरकार का हित निहित है तो उपखण्ड अधिकारी, मामला कलेक्टर को प्रस्तुत करेगा. (3) उपधारा (2) के अधीन मामला प्राप्त होने पर कलेक्टर ऐसी जांच जैसी कि वह ठीक समझे, करेगा और ऐसा आदेश पारित करेगा जैसा कि वह उचित समझे.". अत: उक्त प्रकरण कलेक्टर को प्रेषित किया जाना था। इस कारण अधीनस्थ न्यायालय का आदेश दिनांक 11.05.2024 स्थिर रखे जाने योग्य न होने से आदेश दिनांक 11.07.2024 से अपास्त किया जाकर श्रीमती माला शर्मा पर कूट रचना व धोखाधड़ी प्रमाणित होने से उनके विरूद्ध आपराधिक प्रकरण दर्ज कराने हेतु आदेश पारित किया गया। इस अनियमितता हेतु श्रीमती माला शर्मा, तहसीलदार को आयुक्त चंबल संभाग मुरैना द्वारा पत्र क्रमांक-स्था./6-2/2024/4957, मुरैना दिनांक 16.10.2024 से आरोप पत्र जारी किया जाकर अनुशासनात्मक कार्यवाही प्रारंभ की गयी है। श्री प्रमोद कुमार व विक्रेता बसंत कुमार को उनके नाम प्रश्नाधीन भूमि कैसे आयी इस संबंध में नोटिस जारी कर जबाव लिया जाकर वर्तमान में प्रकरण क्रमांक 0019/निगरानी/2024-25 कलेक्टर न्यायालय में संचालित है। (घ) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित सर्वें क्र. की शासकीय भूमि को निजी भूमि दर्ज होने के तुरंत बाद भू-माफियाओं द्वारा भूमि पर भू-खण्ड विकसित कर विक्रय नहीं की गई है। इस संबंध में इस कार्यालय में कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है।
नियुक्ति, पदस्थापना एवं निर्माण कार्यों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
112. ( क्र. 2581 ) श्री मधु भगत : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2021-2022, 2023-2024 से प्रश्न दिनाँक तक समन्वयक जिला शिक्षा केन्द्र (DPC) बालाघाट में जिले के किन-किन विकासखंड के किस-किस ग्राम पंचायतों में कितने अतिरिक्त कक्षों एवं नवीन स्कूलों, भवनों का निर्माण किया गया? कितने पूर्ण है? कितने प्रगतिरत है? सूची उपलब्ध करावें। (ख) समस्त निर्माण कार्यों की प्रशासकीय स्वीकृति एवं तकनीकी स्वीकृति पूर्ण किये गये कार्यों की सी.सी. साथ ही मटेरियल लेब टेस्ट रिपोर्ट के साथ-साथ यदि ग्राम पंचायतों को कार्य एजेंसी बनाया गया है, पंचायत के साथ किये गये अनुबंध के स्टाम्प की प्रति उपलब्ध करावें। (ग) कराये गये समस्त निर्माण कार्यों के प्राक्कलन की प्रतियां सहित ग्राम पंचायतों को जारी निर्माण कार्यों की राशि की प्रति उपलब्ध करावें। (घ) जिले के समस्त विकासखंडों में किस-किस स्थान पर कौन-कौन से सहायक यंत्री कितने वर्षों से सेवा दे रहे हैं? पदस्थापना के समस्त दस्तावेज उपलब्ध करावें। साथ ही कितने उपयंत्री प्रभारी अधिकारी बनाये गये है? सूची उपलब्ध करावें। साथ ही विभाग में पदस्थ समस्त सहायक यंत्री की वरिष्ठता सूची उपलब्ध करावें। यदि दस वर्षों से सहायक यंत्री एक ही स्थान पर कार्यरत हैं तो क्या कारण है कि सहायक यंत्रियों की नवीन पदस्थापना नहीं की गई? कारणों सहित पदस्थापना एवं प्रभारी बनाये जाने के शासन के निर्देशों के दस्तावेज उपलब्ध करावें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' पर है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' पर है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' पर है। (घ) जिले में विकासखण्ड हेतु सहायक यंत्री का पद स्वीकृत नहीं है। कार्य व्यवस्था की दृष्टि से कार्यालय कलेक्टर बालाघाट के आदेश क्रमांक 10496 दिनांक 16.10.2012 के तहत जिले स्तर पर 02 उपयंत्री श्री शिवेन्द्र सिंह रांहगडाले एवं श्री भास्कर शिव को सहायक यंत्री का प्रभार दिया गया है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''द'' पर है। संविदा पर कार्यरत कर्मचारियों की वरिष्ठता का प्रावधान नहीं है। सहायक यंत्री की पदस्थापना जिले स्तर पर किसी स्थान विशेष के लिए होती है। संविदा स्थानांतरण नीति के तहत आवश्यकतानुसार नवीन पदस्थापना की कार्यवाही की जाती है। पदस्थापना की कार्यवाही संविदा स्थानांतरण नीति के तहत की जाती है। प्रभारी का दायित्व स्थानीय स्तर से कलेक्टर द्वारा दिया जाता है।
शिक्षकों की भर्ती
[स्कूल शिक्षा]
113. ( क्र. 2587 ) श्री कैलाश कुशवाहा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश में स्कूल शिक्षा विभाग में 27 दिसंबर, 2024 तक की स्थिति में उच्च माध्यमिक शिक्षक (वर्ग-1) के कुल कितने पद स्वीकृत है और स्वीकृत पदों में से कितने पदों पर वर्ग 1 के शिक्षक कार्यरत हैं? जानकारी दें। (ख) स्कूल शिक्षा विभाग में उच्च माध्यमिक शिक्षक के कुल कितने पदों की वित्तीय स्वीकृति हैं जो सीधी भर्ती द्वारा भरे जाने हैं जो कि अभी रिक्त हैं? जानकारी दें। (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार विषयवार रिक्त पदों की जानकारी दें, क्या उच्च माध्यमिक शिक्षक भर्ती 2023 में पदवृद्धि का कार्य विभाग में प्रचलन में है? या नहीं, अगर है तो कब तक पदवृद्धि होगी और कितने पदों पर होगी, 01/01/2020 से लेकर 31/12/2024 तक उच्च माध्यमिक शिक्षक (वर्ग-1) के कुल कितने शिक्षक सेवानिवृत्त हुए है? संख्यात्मक जानकारी दें। (घ) शिवपुरी जिले में विगत 01 वर्ष में कितने प्राथमिक एवं माध्यमिक शिक्षकों को 12 वर्ष एवं 24 वर्ष में क्रमोन्ऩति के आदेश जारी किये गये हैं तथा जारी आदेशों के क्रम में कितने शिक्षकों को एरियर की राशि एवं बढ़ी हुई राशि का भुगतान किया जा चुका है, यदि नहीं, तो क्यों? कितने संकुल प्रभारियों द्वारा उक्त आदेश का पालन नहीं किया गया, तो पालन कब तक कर लिया जायेगा? संकुलवार सूची एवं जानकारी दी जावे।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) स्कूल शिक्षा विभाग में उच्च माध्यमिक शिक्षक (व्याख्याता सहित) के 55056 पद स्वीकृत है एवं दिसम्बर 2024 की स्थिति में 34097 लोक सेवक कार्यरत है। (ख) वित्त विभाग द्वारा जारी आदेश जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''एक'' अनुसार है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''दो'' अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''दो'' अनुसार है। जी नहीं, पदवृद्वि का कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। प्रश्नांकित अवधि में कुल 303 उच्च माध्यमिक/शिक्षक व्याख्याता सेवानिवृत्त हुए है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''तीन'' अनुसार है। कोष एवं लेखा कार्यलय में ऑनलाईन वेतन निर्धारण अनुमोदन होने के पश्चात एरियर राशि का भुगतान किया जा सकेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
सिकल सेल एनीमिया प्रोग्राम
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
114. ( क्र. 2599 ) श्री नारायण सिंह पट्टा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अप्रैल 2020 से अप्रैल 2022 तक मंडला जिले को कितनी राशि किस-किस मद में प्रदाय की गई? उक्त राशि का उपयोग कहाँ-कहाँ एवं किन-किन कार्यों/खरीदी/भुगतान हेतु किया गया, संबंधित बिलों एवं उपयोगिता प्रमाण-पत्र की प्रतियाँ उपलब्ध कराएं? क्या जिला कलेक्टर मंडला द्वारा इस दौरान विभाग अंतर्गत किसी अनियमितता/शिकायत/ गड़बड़ी की जाँच करवाई गई थी, यदि हाँ, तो जाँच प्रतिवेदन उपलब्ध करावें। (ख) सिकल सेल एनीमिया से संबंधित प्रोग्राम वर्तमान में किन-किन संस्थाओं/एनजीओ द्वारा संचालित किया जा रहा है? इसके अंतर्गत कौन-कौन सी गतिविधि व कार्य संबंधित द्वारा किये जा रहे हैं? संबंधित एनजीओ/संस्था के साथ किये गए अनुबंध एवं कार्यादेश की प्रतियाँ उपलब्ध करावें? संबंधित संस्था/एनजीओ को अब तक कितना-कितना भुगतान कब-कब किया गया है, संबंधित बिलों/मांग पत्रों की प्रतियाँ उपलब्ध करावें। (ग) मंडला जिले में वर्ष 2020 से प्रश्न दिनांक तक कौन-कौन भवन निर्माण के कार्य किये गए हैं एवं किये जा रहे हैं, संबंधित कार्य का नाम, लागत राशि, निर्माण एजेंसी का नाम पूर्णता, अपूर्णता की स्थिति सहित जानकारी उपलब्ध कराएं? निर्माण कार्यों में गुणवत्ता की कमी को लेकर क्या कोई जाँच की जाएगी? यदि हाँ, तो कब तक, किनके द्वारा जाँच कराई जाएगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) अप्रैल-2020 से अप्रैल-2022 तक की अवधि में मंडला जिले को आवंटित बजट एवं व्यय की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। बिलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। उपयोगिता प्रमाण-पत्र जारी नहीं किये जाते है। जी नहीं। कलेक्टर मंडला द्वारा विभाग अंतर्गत किसी अनियमितता/शिकायत/गड़बडी की जांच नहीं करवाई गई। (ख) सिकल सेल एनिमिया से संबंधित कार्यक्रम वर्तमान में भारत सरकार के ''राष्ट्रीय सिकल सेल उन्मूलन मिशन-2047'' अंतर्गत राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन म.प्र. ''राज्य हीमोग्लोबिनोपैथी मिशन'' के द्वारा संचालित किया जा रहा है। कार्यक्रम के अंतर्गत आदिवासी बाहुल्य विकासखंडो में सिकलसेल एनीमिया की स्क्रीनिंग जांच पी.ओ.सी. किट के माध्यम से करने के लिए एन.एच.एम. द्वारा निविदा के माध्यम से आउटसोर्स एजेन्सियों को चिन्हित कर स्क्रीनिंग कार्य किया जा रहा है। मंडला जिले में इस कार्य हेतु मेसर्सं नीलम ट्रेडर्स को अनुबंध दिनांक से अब तक स्क्रीनिंग कार्य हेतु अनुबंधित कर दर राशि रू. 101/-प्रति जांच के मान से भुगतान की दिनांकवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। बिलो/मांग पत्रों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ई'' अनुसार। जी नहीं, निर्माण कार्य गुणवत्तापूर्ण एवं मानक मापदण्ड अनुसार कराये जा रहे है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
गुणवत्ताहीन कार्यों की शिकायतों की जांच
[जल संसाधन]
115. ( क्र. 2636 ) श्री मोंटू सोलंकी : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा सेंधवा क्षेत्र सेंधवा की ग्राम पंचायत झापडीमली एवं खुटवाडी में विभाग द्वारा बैराज निर्माण कार्य करवाया गया है। उक्त बैराजों की गुणवत्ता के संबंध में प्रश्न दिनांक तक विभाग को कितनी शिकायतें किस माध्यम से प्राप्त हुई तथा उक्त अनुसार शिकायतों की प्रति उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार प्रश्न दिनांक तक प्राप्त शिकायतों पर विभाग द्वारा कब-कब जाँच करवाई गई है तथा प्राप्त जाँच रिर्पोट के आधार पर क्या-क्या कार्यवाही की गई है? जांच रिर्पोट सहित जानकारी देवें। (ग) विधानसभा सेंधवा क्षेत्र में आगामी 03 वर्षों में विभाग द्वारा कितने बैराज निर्माण की कार्ययोजना तैयार की गई है तथा इसके लिए क्या बजट की मांग की गई?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी हां, सनफदेव बैराज निर्माण करवाया जाना प्रतिवेदित हैं। उक्त बैराज की गुणवत्ता के संबंध में प्रश्न दिनांक तक विभाग को एक शिकायत कलेक्टर बड़वानी के माध्यम से प्राप्त होना प्रतिवेदित है। प्रति पुस्तकालय में रखे ''परिशिष्ट-1'' अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार प्राप्त शिकायत पर विभाग द्वारा दिनांक 02/08/2024 को कार्यपालन यंत्री, जल संसाधन संभाग, बड़वानी द्वारा जांच दल का गठन किया गया। जांच दल द्वारा दिनांक 07/08/2024 को निर्माण स्थल का भौतिक सत्यापन किया गया। निरीक्षण में जांच दल द्वारा बैराज का निर्माण गुणवत्ता पूर्वक कराया जाना प्रतिवेदित है। अत: किसी कार्यवाही की स्थिति नहीं है। जांच रिपोर्ट की प्रति पुस्तकालय में रखे ''परिशिष्ट-2'' अनुसार है। (ग) विधान सभा सेंधवा क्षेत्र में आगामी 03 वर्षों में 08 योजनाओं की कार्य योजना तैयार की गई है जिनमें 02 की प्रशासकीय स्वीकृति प्राप्त होना प्रतिवेदित है। शेष 06 की स्वीकृति प्राप्त होने के उपरांत बजट की मांग की जा सकेगी। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के ''प्रपत्र-अ'' अनुसार है।
वीर शहीद ख्वाजा नायक स्मारक
[संस्कृति]
116. ( क्र. 2637 ) श्री मोंटू सोलंकी : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा सेंधवा क्षेत्र के बख्तरिया ग्राम में वीर शहीद ख्वाजा नायक स्मारक बनवाने की घोषणा तत्कालीक मुख्यमंत्री महोदय द्वारा वर्ष 2017 की गई थी किन्तु उक्त घोषणा पर वर्तमान तक विभाग द्वारा अमल नहीं किया गया। जनभावना को दृष्टिगत रखते हुए कब तक उक्त स्थान पर वीर शहीद ख्वाजा नायक स्मारक बन सकेगा? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार वीर शहीद ख्वाजा नायक स्मारक बनने में विलंब क्यों हुआ तथा क्या इसके द्वारा उक्त स्मारक के लिए कोई बजट आवंटित किया गया है? यदि हाँ, तो कब एवं कितना? जानकारी देवें। (ग) क्या विभाग द्वारा जिले के वीर आदिवासी नायकों की जन्म एवं कर्मस्थली को उचित संरक्षण प्रदान करने के लिए कोई कार्ययोजना बनाई गई है? यदि हाँ, तो जानकारी देवें। यदि नहीं, तो क्यों नहीं?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) विभाग अंतर्गत वीर शहीद ख्वाजा नायक स्मारक बनाने की कोई योजना प्रस्तावित नहीं है। (ख) एवं (ग) उत्तरांश (क) अनुसार।
रिक्त पदों की पूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
117. ( क्र. 2670 ) श्री नीरज सिंह ठाकुर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बरगी विधानसभा क्षेत्र के शहपुरा एवं जबलपुर विकासखण्ड के उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, हाई स्कूल, माध्यमिक एवं प्राथमिक शालाओं में शालावार, विषयवार, शिक्षकों के कितने पद रिक्त हैं? (ख) जबलपुर जिले की शालाओं में प्राचार्यों, प्रधान अध्यापकों के रिक्त पदों के विरूद्ध किन-किन शिक्षकों को शालावार उच्च पद का प्रभार दिया गया है? उन शिक्षकों का मूल पद क्या है? (ग) म.प्र. स्कूल शिक्षा विभाग में गैर स्नातकोत्तर, उच्च श्रेणी शिक्षकों और माध्यमिक शिक्षकों को प्रधान अध्यापक माध्यमिक शाला का उच्च पद प्रभार क्यों नहीं दिया गया है? क्या रिक्त पदों पर वरिष्ठता के आधार पर उन्हें उक्त उच्च पद का प्रभार दिया जावेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-एक अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-दो अनुसार है। (ग) भर्ती एवं पदोन्नति नियमों में संशोधन की कार्यवाही प्रचलन में है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
पर्यटन विभाग द्वारा कराये गये कार्य
[पर्यटन]
118. ( क्र. 2671 ) श्री नीरज सिंह ठाकुर : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि पर्यटन विभाग के कार्यपालन यंत्री, संभाग द्वारा संभाग में विगत 5 वर्षों में स्थानवार, कार्यवार, कौन-कौन से कार्य कितनी-कितनी राशि के कराये गये हैं? उपरोक्त निर्माण कार्यों का मापन, मूल्यांकन एवं सत्यापन भुगतान किन-किन उपयंत्रियो, सहायक यंत्रियों, कार्यपालन यंत्री द्वारा दिया गया है?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
आयुष्मान योजनांतर्गत उपचार का लाभ
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
119. ( क्र. 2672 ) श्री नीरज सिंह ठाकुर : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में आयुष्मान योजनांतर्गत प्रदान करने हेतु जिलावार कौन-कौन से हॉस्पिटल किन-किन बीमारियों के लिये अधिकृत हैं? (ख) आयुष्मान योजनांतर्गत जबलपुर जिले के अधिकृत हॉस्पिटलों में विगत 5 वर्षों में कितने एवं किन-किन मरीजों को स्वास्थ्य लाभ/उपचार प्रदान किया गया? उपरोक्त उपचार हेतु शासन द्वारा वर्षवार हॉस्पिटलवार कितनी-कितनी राशि का भुगतान किया गया? उपचार प्राप्त करने वाले मरीजों का नाम, पता सहित विवरण दें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ''अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' (पैनड्राइव में संकलित) अनुसार। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स''अनुसार।
कार्यरत रेगुलर कर्मचारियों/अधिकारियों को एम्प्लॉय कोड
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
120. ( क्र. 2673 ) श्रीमती एडवोकेट निर्मला सप्रे : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासकीय स्वशासी मेडिकल कॉलेज में नव नियुक्त रेगुलर कर्मचारियों को एम्प्लॉय कोड जारी करने कोई नियम या समय-सीमा निर्धारित हैं? (ख) रेगुलर कर्मचारियों को एम्प्लॉय कोड जारी नहीं होने से सेवा के दौरान कर्मचारी की मृत्यु होने पर ग्रेच्युटी का लाभ नहीं मिल पा रहा है। शासकीय आवास के लिए ऑनलाइन आवेदन नहीं कर पा रहे है, एनपीएस राशि स्वत: जमा नहीं हो पा रही है चालान द्वारा जमा की जा रही है, कर्मचारियों का डाटा online नहीं हो रहा है, क्या शासन शासकीय स्वशासी चिकित्सा महाविद्यालय में कार्यरत रेगुलर कर्मचारियों का एम्प्लॉय कोड जारी होगा, यदि हाँ, तो कब तक?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) एवं (ख) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
शमशान भूमि पर अतिक्रमण
[राजस्व]
121. ( क्र. 2690 ) श्री सिद्धार्थ तिवारी : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि क्या ग्राम कर्पवाह कोठार तहसील रामपुर बघेलान जिला सतना स्थित भूमि खसरा नंबर 122 रकवा 0.4540 हे. अभिलेख में मरघट कब्रिस्तान दर्ज है और उसमे शमशान के रूप में ग्रामवासियों का निस्तार होता आ रहा था? यदि हाँ, तो क्या उक्त शमशान भूमि के अधिकांश भाग पर गांव के ही एक सरहंग व्यक्ति द्वारा अतिक्रमण विगत वर्षों में किया गया था और इस वर्ष भी अतिक्रमण कर फसल बो लिया है, जिससे ग्रामवासियों का निस्तार प्रभावित हो रहा है? यदि हाँ, तो क्या ग्रामवासियों ने अतिक्रमण हटाने हेतु तहसीलदार, कलेक्टर एवं कमिश्नर कार्यालय में आवेदन दिया था, किन्तु अभी तक कोई कार्यवाही नहीं हुई है? यदि हाँ, तो क्या मौके से अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही की जाएगी, यदि हाँ, तो कब तक?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : जी हाँ। तहसील रामपुर बाघेलान अंतर्गत ग्राम कर्पवाह कोठार की भूमि खसरा नं. 122 रकवा 0.454 हे. है, जिसमें राजस्व खसरा अभिलेख में मरघट कब्रिस्तान दर्ज है। उक्त शमशान भूमि में गांव के ही दिलीप पाण्डेय पिता रामाधार पाण्डेय द्वारा अतिक्रमण किये जाने संबंधी शिकायत, शिकायतकर्ता सचिन कुमार द्विवेदी सा. कर्पवाह के नाम से तहसील एवं वरिष्ठ कार्यालय में की गई थी। उक्त शिकायती आवेदन पर न्यायालयीन कार्यवाही न्यायालय नायब तहसीलदार वृत्त चोरहटा के राजस्व प्रकरण क्रमांक 0007/अ-68/2023-24 में पारित आदेश दिनांक 05.12.2024 के द्वारा अतिक्रमणकर्ता को रु. 2000/- का अर्थदण्ड अधिरोपित किया जाकर बेदखल कर दिया गया है। वर्तमान में मौके पर अतिक्रमण नहीं है। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होता है।
विद्यालय का हाई स्कूल में उन्नयन
[स्कूल शिक्षा]
122. ( क्र. 2713 ) श्री बृज बिहारी पटैरिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शा.पू.मा.वि. बधैंया डायस कोड (2314070 6303) के उन्नयन का प्रस्ताव हायर सेकेण्ड्री के रूप में विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी हनुमना जिला रीवा के द्वारा पत्र क्र./बि./04/275 हनुमना दिनांक 31/05/2004 को जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय को प्रेषित किया गया था। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार जिला शिक्षा अधिकारी के पत्र क्र./योजना/बधैया//हा.स्कूल/04/62 दिनांक 15/06/2004 को उक्त प्रस्ताव का अनुमोदन संचालक लोक शिक्षण संचालनालय म.प्र. भोपाल को भेजा गया था, जिसे तत्कालिन विधायक मऊगंज आई.एम.पी. वर्मा एवं देवतालाब विधायक पंचूलाल प्रजापति द्वारा शा.पू.मा.वि. बधैंया को हाई स्कूल के रूप में उन्नयन के प्रस्ताव का अनुमोदन किया गया था। यदि हां, तो उक्त प्रस्ताव पर आज दिनांक तक क्या कार्यवाही हुई? (ग) क्या शा.मा.शि.अभियान समिति लोक शिक्षा संचालनालय, भोपाल (462023) के पत्र क्र./योजना/ब/आयोजन/2015-16/280 भोपाल दिनांक 05/05/2016 के अनुसार मा.शा.का हा.स्कूल में उन्नयन सूची के क्र. 333 में शा.मा.वि. बढ़ैया (23140705201) अंकित है जबकि डायस कोड बधैंया का होने के कारण उक्त विद्यालय बधैंया में संचालित कर दिया गया है? यदि हां, तो क्यों? (घ) क्या प्रश्नांश (ग) में त्रुटि पूर्ण डायस कोड सुधार कर शा.पू.मा.वि. बधैंया को हाई स्कूल के रूप में उन्नयन की कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं तो क्यों? कारण बतावें। (ड.) क्या निकटतम विद्यालय शा.पू.मा.शाला बधैंया से 8-10 किलोमीटर दूर होने के कारण छात्र-छात्राओं का कक्षा 8 के बाद पढ़ाई छोड़ दी जाती है बच्चों के भविष्य को देखते हुए उक्त विद्यालय का उन्नयन कब तक कर दिया जावेगा? समय-सीमा बतावें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नही। जिला शिक्षा अधिकारी रीवा का पत्र क्र. 821-822 दिनांक 15.06.2014 के द्वारा प्रस्ताव प्रेषित किया गया था। सीमित बजट प्रावधान एवं संख्या के कारण समस्त पात्र शालाओं का उन्नयन संभव नहीं हो पाता है। (ग) जी नहीं। अपितु राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान समिति लोक शिक्षण संचालनालय का पत्र क्रं/योजना/ब आयोजना/2015-16/200 दिनांक 05.05.2016 अनुसार माध्यमिक शाला का हाई स्कूल में उन्नयन किया गया। जी नहीं शा.मा. शाला बधइया डाईस कोड 23140705201 अंकित हुआ था, भारत सरकार द्वारा वास्तविक स्वीकृति डाईस कोड 23140705201 मा. शाला बढैया की स्वीकृति प्रदान की गई थी। अत: शेषाश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश (ग) अनुसार। (ड.) वर्तमान में प्रश्नाधीन शाला उन्नयन मापदण्ड की पूर्ति नहीं करती है। अत: शेषाश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शासकीय एस.एन.जी.उ.मा. विद्यालय की भूमि की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
123. ( क्र. 2715 ) श्री विजयपाल सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधान सभा क्षेत्र नर्मदापुरम् के अंतर्गत शास.एस.एन.जी.उ.मा. विद्यालया हेतु कितनी शासकीय भूमि आवंटित है? उसके खसरा नं. की प्रति एवं कुल रकबे की जानकारी उपलब्ध कराई जायें। (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में उक्त शाला वर्तमान में कितनी शासकीय भूमि पर संचालित हो रही है विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराई जाये। (ग) शासकीय एस.एन.जी.उ.मा.वि. में क्या खेल ग्राउंड भी उपलब्ध है? यदि हाँ, तो खेल ग्राउंड हेतु कितने रकबे की जगह चिन्हित है? क्या खेल ग्राउंड के आसपास अतिक्रमण है हाँ तो क्या उक्त अतिक्रमण को हटाये जाने के संबंध में कार्यवाही की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत शासकीय एस.एन.जी.उ.मा.विघालय को शासकीय भूमि आवंटित नहीं है। शेषांश जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जानकारी निरंक है। (ग) जी हाँ। उत्तरांश (क) के प्रकाश में 60,186 वर्गफुट पर खेल ग्राउण्ड उपलब्ध है। जी नहीं। अतः शेषांश उद्भूत नहीं होता।
चिकित्सकों की पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
124. ( क्र. 2729 ) श्री सुरेन्द्र पटवा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भोजपुर विधानसभा क्षेत्र में स्थित प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में कुल कितने चिकित्सक के पद रिक्त हैं? (ख) कब तक चिकित्सकों की पूर्ति कर दी जायेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) भोजपुर विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत 03 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र यथा प्रा.स्वा.के. बरखेड़ा, प्रा.स्वा.के. चिकलोद एवं प्रा.स्वा.के. सुल्तानपुर संचालित हैं। उक्त तीनों संस्थाओं में चिकित्सक कार्यरत हैं एवं पद रिक्त नहीं है। (ख) उत्तरांश (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
चिकित्सकों की पूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
125. ( क्र. 2730 ) श्री सुरेन्द्र पटवा : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला रायसेन के अंतर्गत मंडीदीप में स्थित शासकीय सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में कितने चिकित्सकों के पद रिक्त है? (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में रिक्त पदों की पूर्ति कब कर दी जायेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) सिविल अस्पताल मण्डीदीप में मेडिसिन विशेषज्ञ का 01, सर्जरी विशेषज्ञ का 01 पद रिक्त है। (ख) रिक्त पदों की पूर्ति एक निरंतर प्रक्रिया है, निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है।
प्रचार-प्रसार में किया गया व्यय
[पर्यटन]
126. ( क्र. 2761 ) श्री ओमकार सिंह मरकाम : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पर्यटन बोर्ड द्वारा पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए कौन-कौन योजना चलाया जा रहा है? वर्ष 2024 से आज तक उन कार्यक्रमों के प्रचार-प्रसार में कब-कब, कितना-कितना व्यय किया गया? किस-किस को भुगतान किया गया? (ख) 2022 से आज दिनांक तक योजनाओं में किसको किसको, किस-किस प्रोजेक्ट के लिए कितना-कितना राशि अनुदान के रूप में कब-कब किसको-किसको दिया गया?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) पर्यटन बोर्ड में प्रचलित योजनाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' एवं ''ब'' अनुसार। (ख) फिल्म परियोजनाओं को अनुदान राशि का विवरण जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' अनुसार एवं निवेश संवर्धन हेतु अनुदान राशि का विवरण जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''द'' अनुसार।
कार्यक्रम आयोजनों की जानकारी
[संस्कृति]
127. ( क्र. 2762 ) श्री ओमकार सिंह मरकाम : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2024 से आज तक कौन-कौन से जगहों (स्थानों) में कौन-कौन से कार्यक्रम आयोजित हुए कार्यक्रमों का उद्देश्य क्या-क्या था? कितना-कितना राशि व्यय हुआ? किसको-किसकों भुगतान किया गया? कार्यक्रमवार जानकारी दें। (ख) आयोजित होने वाले कार्यक्रमों क्या स्थानीय विधायकों को आमंत्रण व जानकारी देने की परम्परा है, अगर हाँ तो डिण्डौरी विधान सभा में आयोजित कार्यक्रमों की जानकारी क्यों नहीं दी गई, अगर नहीं तो नियम क्यों नहीं?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) विभाग द्वारा प्रदेश के अन्य जिलों में आयोजित कार्यक्रम स्थानीय जिला प्रशासन के सहयोग से आयोजित किए जाते हैं। स्थानीय स्तर पर जनप्रतिनिधियों को जिला प्रशासन द्वारा आमंत्रित किया जाता है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्कूल के दस्तावेजों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
128. ( क्र. 2773 ) डॉ. राजेन्द्र कुमार सिंह : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासकीय हायर सेकेण्डरी स्कूल कम्पू ग्वालियर में शैक्षणिक वर्ष 1987 से 1992 के दौरान कक्षा 11वीं, सेक्शन-डी (ग्यारहवीं डी-सेक्शन) में पढ़ने वाले छात्र मनोज कश्यप के द्वारा स्कूल में अपनी किस जाति का उल्लेख दस्तावेजों में किया है? सभी दस्तावेजों की एवं उल्लेखित जाति की एक-एक प्रति दें। उक्त छात्र के पिता जी का नाम श्री छोटेलाल कश्यप है, क्या उनकी जाति का उल्लेख पुत्र के दस्तावेंजो में किया है? (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित छात्र की क्या जन्म तिथि एक जुलाई उन्नीस सौ तिहत्तर दस्तावेजों में दर्ज है? उक्त छात्र मनोज कश्यप ने किस वर्ष किस कक्षा में उक्त स्कूल में एडमीशन लिया एवं किस वर्ष किस कक्षा से स्कूल से टी.सी. प्राप्त की? टी.सी. की एक प्रति उपलब्ध करायें। सभी कक्षाओं की मार्कशीटों की भी एक-एक प्रति दें। (ग) स्कूल में उक्त छात्र ने जाति के उल्लेख करने वाले स्थान पर क्या लिखा था? एक प्रति दें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नांश में वर्णित विद्यालय के नाम से कोई विद्यालय कम्पू क्षेत्र में संचालित नहीं है, अपितू सिकन्दर कम्पू क्षेत्र ग्वालियर में शास. कन्या. उमावि. सिकन्दर कम्पू संचालित है। यह विद्यालय 2018-2019 में उच्चतर माध्यमिक विद्यालय के रूप में उन्नयन हुआ है। अतः शेषांश का प्रश्न ही उद्भूत नहीं होता। (ख) एवं (ग) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में प्रश्न ही उद्भूत नहीं होता है।
सिंचाई की व्यवस्था
[जल संसाधन]
129. ( क्र. 2785 ) श्री पंकज उपाध्याय : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र जौरा में कृषि भूमि तक जल पहुँच स्रोतों का पदस्थ क्षेत्रीय कर्मचारियों/ अधिकारियों द्वारा निरीक्षण कर समय अनुसार सिंचाई का संक्षिप्त प्रबंध कर निरंतर रूप से सिंचाई कर वसूली की जाती है? यदि हाँ, तो वर्तमान में कितने सिंचाई कृषि भूमि क्षेत्र में कितने कृषकों को वर्ष में कितने दिन सिंचाई जल की उपलब्धता दी जाती है एवं कितने कृषक सिंचाई से लाभान्वित न होकर वंचित रह जाते हैं? सिंचाई कर की प्रति बीघा दर कितनी है? (ख) क्या विभाग द्वारा भूमि तक पानी पहुंचाने हेतु क्षतिग्रस्त जल स्रोतों की दुरूस्ती हेतु आवंटन उपलब्ध कराया जाता है? यदि हाँ, तो विधानसभा क्षेत्र जौरा अंतर्गत वर्ष 2018 से वर्तमान तक ऐसे कितने स्रोतों की कहां-कहां दुरुस्ती कराई गई? स्थान सहित एवं व्यय की राशि की जानकारी उपलब्ध कराएं। (ग) क्या प्राकृतिक भूमिगत जल स्रोत नदी नलकूप बोरवेल अथवा अन्य निजी साधन से सिंचित भूमि की भी कर वसूली के लिए सिंचाई विभाग अधिकृत है? यदि हाँ, तो शासन द्वारा निर्धारण नियमावली उपलब्ध करावे एवं उक्तानुसार स्रोतों से कितनी कृषि भूमि सिंचित होती है? पृथक–पृथक स्रोतवार एवं निर्धारित कर वसूली प्रतिशत बीघा अनुसार बताएं एवं विभाग द्वारा उक्त स्रोतों से सिंचाई हेतु कृषकों को क्या-क्या सुविधा उपलब्ध कराई जाती हैं?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जी हाँ। बांधो/जल संरचनाओं में जल भराव अनुसार जल की उपलब्धता के आधार पर लगभग 38,292 हेक्टेयर क्षेत्र में लगभग 30,106 कृषकों को जिला जल उपयोगिता समिति में लिए गये निर्णय अनुसार निर्धारित रोटेशन के माध्यम से 75-100 दिवस तक जल प्रदाय किया जाना प्रतिवेदित है। कोई भी कृषक सिंचाई से वंचित नहीं रहना प्रतिवेदित है। सिंचाई कर की दर शासन द्वारा जारी गजट 2021 के अनुसार लगाई जाना प्रतिवेदित है। सिंचाई कर हेतु पारित गजट की प्रति पुस्तकालय में रखे ''परिशिष्ट-एक'' अनुसार है। (ख) जी हाँ। विधानसभा क्षेत्र जौरा अंतर्गत वर्ष-2018 से प्रश्न दिनांक तक दुरूस्त कराए गए जल स्त्रोत/जल संरचनाओं की, स्थान एवं व्यय राशि सहित जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के ''प्रपत्र-अ'' अनुसार है। (ग) जी नहीं। विभाग द्वारा निर्मित बांधो/जल संरचनाओं से ही सिंचाई हेतु पानी प्रदाय किया जाना तथा तदानुसार कर वसूली एवं सिंचाई रिकार्ड की जाना प्रतिवेदित है।
आयुष्मान भारत योजना की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
130. ( क्र. 2786 ) श्री पंकज उपाध्याय : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) आयुष्मान भारत योजना के तहत जिला मुरैना एवं ग्वालियर में कितने-कितने निजी चिकित्सालय अनुबंधित है तथा किन-किन चिकित्सालयों को किन-किन कारणों से योजना से हटाया गया? वर्ष 2021-22 से वर्तमान तक की जानकारी वर्षवार उपलब्ध करायें। (ख) आयुष्मान भारत योजना के तहत जिला मुरैना एवं ग्वालियर में किस-किस अस्पताल में कितने-कितने मरीजों के उपचार हेतु कितनी-कितनी राशि उपलब्ध करायी गई? मरीजों के नाम, पते, स्वीकृत राशि की सूचीबद्ध जानकारी वर्ष 2021-22 से वर्तमान तक चिकित्सालयवार एवं वर्षवार उपलब्ध करायें। (ग) आयुष्मान भारत योजना के तहत जिला मुरैना एवं ग्वालियर में निजी चिकित्सालयों द्वारा अनावश्यक व्यय दर्शाकर आवश्यकता से अधिक राशि का प्राक्कलन शासन को भेजे जाने, वास्तविकता से अधिक दिनों तक मरीज को भर्ती दर्शाये जाने एवं इलाज न किये जाने पर भी साठ-गांठ कर फर्जी तरीके से उपचार किया जाना दर्शाकर भ्रष्टाचार किये जाने की कितनी शिकायतें प्राप्त हुई एवं उन पर क्या कार्यवाही हुई? विस्तृत जानकारी वर्ष 2021-22 से वर्तमान तक वर्षवार प्रदान करायें। (घ) आयुष्मान भारत योजना के तहत पारदर्शिता की दृष्टि से किस अधिकारी द्वारा कब-कब, किस-किस निजी चिकित्सालय का निरीक्षण किया गया? क्या-क्या अनियमितताएं पाई गईं? निरीक्षणों की वर्ष 2021-22 से वर्तमान तक की जानकारी वर्षवार उपलब्ध करायें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ''अनुसार। जिला मुरैना एवं ग्वालियर में STANDARD OPERATING PROCEDURES FOR DE-EMPANELMENT OF PROVIDERS (SOP) एवं MEMORANDUM OF UNDERSTANDING (MOU) के दिशा-निर्देशों का उल्लंघन पाए जाने पर किसी भी चिकित्सालय को आयुष्मान योजनांतर्गत असंबद्ध नहीं किया गया है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब''अनुसार। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स''अनुसार। (ग) आयुष्मान भारत योजना में प्रत्येक पैकेज की एक निश्चित राशि निर्धारित है उसके अतिरिक्त राशि नहीं दी जाती है। निजी चिकित्सालयों द्वारा अनावश्यक व्यय दर्शाकर आवश्यकता से अधिक राशि का प्राक्कलन शासन को भेजे जाने संबंधी शिकायतें आयुष्मान कार्यालय को प्राप्त नहीं हुई हैं। वास्तविकता से अधिक दिनों तक मरीज को भर्ती दर्शाये जाने संबंधी 33 शिकायते प्राप्त हुई तथा कार्यवाही उपरांत राशि 67,67,026/- का अर्थदण्ड लगाया गया। फर्जी तरीके से उपचार किया जाना दर्शाकर संबंधी शिकायतें आयुष्मान कार्यालय को प्राप्त नहीं हुई हैं। हितग्राही से अनाधिकृत रूप से ली गई राशि की शिकायतें 145 आयुष्मान कार्यालय को प्राप्त हुई हैं। शिकायत प्रमाणित होने के उपरांत आयुष्मान कार्यालय द्वारा जारी STANDARD OPERATING PROCEDURES (SOP) के दिशा-निर्देशों अनुसार संबंधित चिकित्सालय के विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही की गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द''अनुसार। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''र''अनुसार।
अनुशासनात्मक कार्यवाही के प्रचलित प्रकरण
[राजस्व]
131. ( क्र. 2788 ) डॉ. सतीश सिकरवार : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला एवं तहसीलों में पदस्थ किस-किस सवंर्ग के शासकीय सेवकों के विरूद्ध अनुशासनात्मक कार्यवाही के अधिकार ''संभागीय आयुक्त'' को प्रदान किये गये है? शासन नियमों/आदेश की प्रति उपलब्ध कराई जावें। (ख) अनुशासनात्मक कार्यवाही प्रचलित रहने के दौरान, किसी शासकीय अधिकारी के संभाग से बाहर स्थानान्तरण होने एवं सेवानिवृत्त होने के उपरान्त, ऐसे प्रकरण अन्तिम निर्णय लिये जाने हेतु विभाग प्रमुख को भेजे जाते है, यदि हां, तो शासन नियमों/आदेश की प्रति उपलब्ध कराई जावें। (ग) प्रश्नांश (ख) के संबंध में प्रदेश के संभागीय आयुक्त कार्यालयों द्वारा वर्ष 1990 से प्रेषित कितने प्रकरण निर्णय लिये जाने हेतु विभाग स्तर पर लम्बित है? नाम एवं विभाग में प्राप्त वर्षवार/दिनांकवार लम्बित प्रकरणों की जानकारी उपलब्ध कराई जावें। (घ) प्रश्नांश (ग) के संबंध में वर्षों से प्रकरण प्रचलित रहने के कारण, कई अधिकारी सेवानिवृत्त हो गये, जिसके कारण उन्हें पदोन्नति का लाभ नहीं मिल पाया। जिसके कारण उनको मिलने वाले लाभों से वंचित किया गया। (ड.) प्रश्नांश (ग) के संबंध में विभाग प्रमुख स्तर पर लम्बित प्रकरणों का निराकरण कब तक किया जावेगा? क्या ऐसे प्रकरणों के निराकरण हेतु समय-सीमा नियत की जावेगी और नहीं तो क्यों?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) मध्यप्रदेश शासन, सामान्य प्रशासन विभाग की अधिसूचना क्रमांक सी-6-1-2008-3-एक भोपाल दिनांक 15.09.2008 एवं 20.10.2008 द्वारा संभागायुक्तों को अपने संभाग में पदस्थ राज्य शासन के प्रथम एवं द्वितीय श्रेणी के शासकीय सेवकों पर अनुशासनात्मक कार्यवाही करने एवं लघुशास्ति अधिरोपित करने के लिये सशक्त किया गया है। ज्ञाप की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार। (ख) हाँ। म.प्र. शासन, सामान्य प्रशासन विभाग का परिपत्र क्रमांक सी-6-2/2010/3/एक भोपाल दिनांक 27.01.2010 की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार। (ग) इंदौर, जबलपुर, उज्जैन, शहडोल एवं ग्वालियर संभागों से प्राप्त प्रकरणों की सूची तथा राजस्व आयुक्त स्तर पर प्रचलित प्रकरणों की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ठ ''स'' अनुसार। (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार प्रकरण समय-सीमा के है। इन प्रकरणों के प्रचलन से पदोन्नति का लाभ प्रभावित नहीं हुआ है। (ड.) विभागीय जांच प्रकरणों का निराकरण नियमानुसार किया जाता है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों को स्थाईकर्मी बनाया जाना
[राजस्व]
132. ( क्र. 2790 ) डॉ. सतीश सिकरवार : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों को स्थाईकर्मी घोषित करते समय क्या कौशल परीक्षण हेतु किसी समिति का गठन किया गया था? आदेश की प्रति प्रदान की जाये। (ख) यदि समिति गठित की गई है, तो समिति द्वारा क्या जिला भू-अभिलेख कार्यालय में कार्यरत दैनिक वेतनभोगियों के कार्य कौशल के संबंध में जानकारी मंगवायी गई है। (ग) आयुक्त भू-अभिलेख कार्यालय द्वारा समय-समय पर उनके विभाग में कार्यरत अकुशल स्थाईकर्मी को अर्द्धकुशल एवं कुशल स्थाईकर्मी घोषित किया गया है। यदि हां, तो मापदण्ड क्या निर्धारित किये गये थे? (घ) जिला स्तरीय समितियों से प्राप्त प्रतिवेदन पर कार्यालय आयुक्त भू-अभिलेख द्वारा क्या निर्णय लिया गया है। यदि नहीं, तो कब तक निर्णय लिया जावेगा? (ड.) म.प्र. शासन सामान्य प्रशासन विभाग के ज्ञापन क्रमांक एफ/5-1/2013/1/3 दिनांक 07.10.2016 में दिये निर्देशानुसार आयुक्त भू-अभिलेख कार्यालय में कार्यरत कितने दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों को स्थाईकर्मी बनाया गया है।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी नहीं। (ख) उत्तरांश (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता (ग) जी हाँ। सामान्य प्रशासन विभाग भोपाल द्वारा जारी ज्ञाप दिनांक 07.10.2016 के क्रम में श्रम विभाग द्वारा जारी मापदण्डों के अनुसार कार्यवाही की गयी थी। (घ) उत्तरांश (ख) अनुसार। (ड.) आयुक्त भू-अभिलेख कार्यालय में कार्यरत 39 दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों को स्थाईकर्मी बनाया गया है।
बायपास हार्ट सर्जरी की सुविधा
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
133. ( क्र. 2792 ) श्री मोहन सिंह राठौर : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में कितने जिला चिकित्सालय एवं मेडिकल कॉलेज से संलग्न चिकित्सालय संचालित किये जा रहे है? (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित चिकित्सालयों में क्या हार्ट सर्जरी/बायपास सर्जरी की सुविधा उपलब्ध है? यदि हां तो कौन-कौन से अस्पतालों में? (ग) प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित हृदय उपचार संबंधी सुविधा यदि उपलब्ध नहीं है तो कितने जिलों के प्रस्ताव हृदय रोग, हार्ट सर्जरी/बायपास सर्जरी की सुविधा उपलब्ध कराने के प्राप्त हुए है? जिलावार विवरण दें। (घ) क्या ग्वालियर के जिला चिकित्सालय जयारोग्य चिकित्सा समूह में हृदय उपचार/ हार्ट सर्जरी/बायपास सर्जरी प्रारंभ करने का प्रस्ताव जयारोग्य चिकित्सा समूह के विभागाध्यक्ष कार्डियोलॉजी, डीन मेडीकल कॉलेज ग्वालियर के द्वारा पत्र अक्टूबर 2024 के माध्यम से शासन को प्रस्ताव प्राप्त हुआ है? यदि हां, तो प्रस्ताव अनुसार सुविधा कब तक उपलब्ध करा दी जायेगी? समय-सीमा बताएं। यदि नहीं, तो क्यों? कारण स्पष्ट करें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) मध्यप्रदेश में 52 जिलों में जिला चिकित्सालय संचालित है। प्रदेश के 17 शासकीय चिकित्सा महाविद्यालयों में से 10 में स्वयं के चिकित्सालय संचालित है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। शेष 7 चिकित्सा महाविद्यालयों में जिला चिकित्सालय सम्बद्ध है। (ख) मात्र 4 चिकित्सा महाविद्यालयों में हार्ट सर्जरी बाईपास की सुविधा उपलब्ध है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। (ग) चिकित्सा महाविद्यालय ग्वालियर से प्रस्ताव प्राप्त हुआ है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। (घ) जी हाँ। वित्तीय संसाधनों की उपलब्धता के आधार पर चिकित्सा महाविद्यालयों में नवीन विभाग खोले जाने का निर्णय लिया जाता है। अत: समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
मत्स्य पालन के लिए सुविधा
[मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास]
134. ( क्र. 2794 ) श्री मोहन सिंह राठौर : क्या राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मत्स्य पालन करने वाले हितग्राहियों को मछली पालन के लिए क्या-क्या सुविधाएं विभाग द्वारा उपलब्ध कराई जाती है? इनके नियम/निर्देश क्या है? प्रति उपलब्ध कराएं। (ख) ग्वालियर जिले में कितने बांधों/तालाबों में मत्स्य पालन का ठेका किन-किन समितियों को कितने अवधि के लिए दिया गया है? बांध/तालाबों/समितिवार जानकारी उपलब्ध करायें। (ग) क्या यह सही है कि प्रश्नांश (क) में उल्लेखित नियमों/निर्देशों के तहत हितग्राहियों को मत्स्य पालन/कियोस्क संचालन/मत्स्य विक्रय केन्द्र के लिए सब्सिडी दी जाती है? यदि हां तो कितनी-कितनी, क्या ग्वालियर जिले के हितग्राहियों के सब्सिडी के प्रस्ताव प्रदेश स्तर पर मुख्यालय में लंबित है? यदि हां तो कब से एवं किस-किस के? (घ) प्रश्नांश (ग) में लंबित प्रस्तावों का निराकरण/स्वीकृति की जाकर राशि हितग्राहियों को कब तक उपलब्ध करा दी जायेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास ( श्री नारायण सिंह पंवार ) : (क) जी हाँ। मत्स्य पालन नीति 2008 की जानकारी मछली पालन हेतु सुविधाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-अ अनुसार। (ख) ग्वालियर जिले में विभाग द्वारा 9 समितियों को बांधो/तालाबों का पट्टा आवंटित किया गया है जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-ब अनुसार। (ग) जी हाँ। सामान्य पिछड़ा वर्ग के हितग्राहियों को 40 प्रतिशत एवं अनुसूचित जाति/जनजाति को 60 प्रतिशत दी जाती है। 10 हितग्राहियों के सब्सिडी प्रस्ताव प्रदेश स्तर पर लंबित है जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-स अनुसार। (घ) भारत सरकार से बजट आवंटन प्राप्त होने पर ही हितग्राहियों के लंबित प्रकरणों का निराकरण किया जाना संभव होगा।
अवैध वसूली पर रोक
[परिवहन]
135. ( क्र. 2795 ) श्री प्रदीप अग्रवाल : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) परिवहन कार्यालय जिला दतिया में कुल कितने अधिकारी कर्मचारी स्थाई/अस्थाई/संविदा/प्राइवेट पदस्थ हैं? उनके नाम, पद सहित जानकारी दी जाए। (ख) प्राइवेट कर्मचारी कार्यालय में नियुक्त करन के क्या नियम है, हाइपोथेसी कटवाने के, वाहन ट्रांसफर करने के क्या नियम है, क्या इसके लिए हितग्राही को कार्यालय में वाहन लेकर आना अनिवार्य है? रेडियम लगी गाड़ियों का फिटनेस बनाने के लिए क्या नियम है? नियमों की छायाप्रति उपलब्ध करायें। (ग) क्या दतिया परिवहन कार्यालय में नियम विरुद्ध प्राइवेट लोगों को बैठाकर बाबू बनाकर कई वर्षों से जनता से अवैध वसूली कराई जा रही है यदि नहीं, तो टीम गठित कर जांच करायें कि दाता राम कुशवाहा, मनोज दांगी, संतोष अहिरवार कार्यालय में किस हैसियत से काम कर रहे हैं जानकारी उपलब्ध करायें। (घ) क्या दतिया कार्यालय में रेडियम लगी गाड़ियों का फिटनेस बनाने के नाम पर प्रमाण-पत्र बनाने के लिए दोबारा रेडियम के नाम से एवं पैनिक बटन लगाने के नाम से लगातार अवैध वसूली हो रही है यदि नहीं, तो जांच कराई जावे यदि हाँ, तो इसके लिए कौन-कौन जिम्मेदार है उनके खिलाफ कार्यवाही प्रस्तावित की जाए।
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जिला परिवहन कार्यालय, दतिया में पदस्थ अधिकारी/ कर्मचारी स्थाई/अस्थाई/संविदा की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'अ' अनुसार है। कार्यालय में कोई प्राइवेट कर्मचारी पदस्थ नहीं है। (ख) मध्यप्रदेश शासन, सामान्य प्रशासन विभाग की अधिसूचना क्रमांक सी 5-1/2017/एक-3 दिनांक 28 सितम्बर, 2017 जारी कर संविदा पर तथा मध्यप्रदेश शासन, वित्त विभाग के परिपत्र क्रमांक एफ 11-10/2012/नियम/चार दिनांक 06 अक्टूबर, 2012 द्वारा परामर्शी नियुक्त करने के नियम जारी किये गये हैं। केन्द्रीय मोटरयान नियम, 1989 के नियम 55 के अंतर्गत वाहन ट्रांसफर तथा उक्त नियमों के नियम 61 के अंतर्गत हाइपोथिकेशन निरस्त किये जाने के प्रावधान हैं इन कार्यों हेतु हितग्राही को कार्यालय में वाहन लेकर जाना अनिवार्य नहीं है। उक्त नियमों के नियम 62 के अंतर्गत दी गई टेबल के सरल क्रमांक 4 अनुसार वाहन पर रिफलेक्टर टेप लगे होना सुनिश्चित किये जाने पर गाड़ियों के फिटनेस बनाये जाते हैं, नियमों की छायाप्रतियां पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'ब' अनुसार है। (ग) जी नहीं, जिला परिवहन कार्यालय, दतिया में उल्लेखित नाम के कोई प्राइवेट व्यक्ति कार्यरत नहीं हैं। विभाग को इस संबंध में प्राप्त होने वाली शिकायतों पर उसकी नियमानुसार जांच कर आवश्यक कार्यवाही की जाती है जिसके परिप्रेक्ष्य में शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता। (घ) जिला परिवहन कार्यालय, दतिया में फिटनेस हेतु शासन द्वारा निर्धारित रेट्रो रिफलेक्टिव टेप एवं पैनिक बटन नियमानुसार लगवा कर फिटनेस करायी जा रही है कार्यालय में कोई भी अवैध वसूली नहीं की जा रही है। विभाग को इस प्रकार की शिकायत प्राप्त होने पर उसकी नियमानुसार जांच कर आवश्यक कार्यवाही की जाती है। शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता।
उप स्वास्थ्य केंद्रों का गुणवत्ताविहीन निर्माण
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
136. ( क्र. 2797 ) श्री प्रदीप अग्रवाल : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दतिया जिले की सेंवढा विधानसभा क्षेत्र में अभी जो 10 उप स्वास्थ्य केंद्र स्वीकृत हुए हैं उनके ठेकेदारों के नाम कार्य की शर्तें अनुबंध की छायाप्रति लागत राशि सहित संपूर्ण जानकारी उप स्वास्थ्य केंद्रवार उपलब्ध करावें। (ख) उक्त उप स्वास्थ्य केंद्रों की कब एवं किस पेपर में निविदा निकाली गई, कितने लोगों द्वारा टेंडर में भाग लिया गया, प्रमाणित दस्तावेजों के साथ छायाप्रति सहित संपूर्ण जानकारी दी जाए। (ग) उक्त उप स्वास्थ्य केन्द्रों का निर्माण कब प्रारंभ हुआ, किनके द्वारा इनका भूमि पूजन किया गया, किस अधिकारी एवं इंजीनियर की देखरेख में यह कार्य हो रहा है उनके नाम एवं पद सहित जानकारी देवें। (घ) क्या उक्त उप स्वास्थ्य केंद्र गुणवत्ताविहीन एवं जमीन की लेवल से बनाए जा रहे हैं जो अतिवृष्टि के समय जल भराव से कभी भी ध्वस्त हो जाएंगे और शासन की राशि का नुकसान होगा, यदि नहीं, तो उप स्वास्थ्य केंद्र चीना की टीम गठित कर जांच कराई जावेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) दतिया जिले के सेंवढा विधानसभा क्षेत्र में 10 उप स्वास्थ्य केन्द्रों के निर्माण कार्य के लिए नियुक्त ठेकेदार एवं स्वीकृत लागत की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। अनुबंध की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। प्रमाणित दस्तावेजों की छायाप्रति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। (ग) निर्माण कार्य प्रारंभ करने की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। कार्य निम्न अधिकारी एवं इंजीनियर की देखरेख में किया जा रहा है:- 1. श्री शशि कुमार बंसल, कार्यपालन यंत्री, राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, संभाग ग्वालियर, म.प्र. 2. श्री अभिषेक शर्मा, उपयंत्री (सिविल), राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, जिला दतिया, म.प्र. 3. सुश्री सपना सेन, उपयंत्री (सिविल), राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, जिला दतिया, म.प्र. 4. श्री दिनेश कुमार शाक्य, उपयंत्री (विद्युत), राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन, संभाग ग्वालियर, म.प्र. (घ) जी नहीं, कार्य गुणवत्तापूर्ण एवं मानक मापदण्डानुसार किया जा रहा है, प्लिंथ की उंचाई आवश्यकतानुसार जमीन से ऊपर है, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मजरा-टोलों का अभिलेख को अद्यतन किया जाना
[राजस्व]
137. ( क्र. 2801 ) श्री ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पन्ना विधानसभा अंतर्गत एन.आई.सी. साफ्टवेयर में कितने मजरा-टोलों एवं उनके मूल ग्रामों का अभिलेख अद्यतन कराया गया था? नामवार बतावें। यदि नहीं, तो आज दिनांक तक अद्यतन न हो पाने के क्या कारण है? (ख) क्या मजरा टोला 2 माड्यूल में प्रश्नांश (क) में उल्लेखित ग्रामों के अभिलेख अद्यतन कराये गये है यदि हाँ, तो ग्रामों मजरा-टोलो के नाम सहित बतावें? यदि नहीं, तो किन ग्राम, मजरा टोलों के अभिलेख अद्यतन नहीं कराए गये है उनक नाम व कारण सहित बतावें? कब तक अभिलेख अद्यतन कराया जावेगा? समय-सीमा बतावें। (ग) क्या प्रश्नांश (क) में उल्लेखित ग्रामों के लिये विधानसभा सत्र फरवरी 2024 अतारांकित प्रश्न क्रमांक 58 दिनांक 12/2/24 में यह उत्तर दिया गया था कि आपेक्षित कार्य शीघ्र पूर्ण कर लिया जावेगा? क्या विधानसभा सत्र जुलाई 2024 के प्रश्न क्रमांक 2419 में भी यह उत्तर दिया गया था कि कार्य पूर्णता पर है? अभी भी कार्य पूर्ण न होने का क्या कारण है? कब तक कार्य पूर्ण करा लिया जावेगा? समय-सीमा बतावें। इसके लिये कौन दोषी है? क्या दोषियो के विरूद्ध कार्यवाही की जावेगी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) पन्ना विधानसभा अंतर्गत निम्नांकित 04 मूल ग्रामों को विभाजित कर मजरा टोलो से 04 नवीन राजस्व ग्राम बनाये गये थे जो निम्नानुसार है –
क्रमांक |
मूल ग्राम |
नवीन राजस्व ग्राम |
1 |
उदयपुर |
ढगरी |
2 |
शहपुरा |
गुरदीनपुरवा |
3 |
खरौनी |
खरौनीपुरवा |
4 |
जिगनी |
बल्दुपुरवा |
उक्त समस्त ग्रामों का राजस्व अभिलेख अद्यतन करने की कार्यवाही पूर्ण की जा चुकी है। (ख) जी हाँ। प्रश्नांश (क) में उल्लेखित निम्नांकित ग्राम का अभिलेख मजरा टोला 2 माड्यूल में अद्यतन कराया गया है -
क्रमांक |
मूल ग्राम |
नवीन राजस्व ग्राम |
1 |
जिगनी |
बल्दुपुरवा |
उपरोक्त के अतिरिक्त निम्नांकित ग्रामों का शासन द्वारा चलाये गये शुद्धीकरण पखवाडा के दौरान अभिलेख अद्यतन किया जा चुका है –
क्रमांक |
मूल ग्राम |
नवीन राजस्व ग्राम |
1 |
उदयपुर |
ढगरी |
2 |
शहपुरा |
गुरदीनपुरवा |
3 |
खरौनी |
खरौनीपुरवा |
उपरोक्तानुसार पन्ना विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत मजराटोला से राजस्व ग्राम बनाये गये समस्त ग्रामों का अभिलेख अद्यतन कराया जा चुका है। कोई कार्यवाही शेष नहीं है। (ग) जी हाँ। विधानसभा सत्र फरवरी 2024 अतारांकित प्रश्न क्रमांक 58 एवं विधानसभा सत्र जुलाई 2024 के प्रश्न क्रमांक 2419 के उत्तर में उल्लेखित 9 मूल ग्रामों से निर्मित 17 नवीन राजस्व ग्रामों के नक्शा विभाजन उपरान्त नक्शे पर तरमीम एवं रिनंबरिंग सूची तैयार करने कार्य तहसीलदार एवं सहायक सर्वेक्षण अधिकारियों के द्वारा कराया जा रहा है, लेख किया गया था। वर्तमान में नवीन राजस्व ग्रामों के नक्शा तरमीम की अद्यतन स्थिति निम्नानुसार है:–
क्र. |
तहसील का नाम |
मूल ग्राम का नाम |
मजरा टोला का नाम |
तरमीम की स्थिति |
1 |
अजयगढ |
खोरा |
ममनीपुरवा |
86.50% |
2 |
अजयगढ |
खोरा |
सुहावा |
82% |
3 |
अजयगढ |
खोरा |
बडी बनकी |
82% |
4 |
अजयगढ |
धरमपुर |
रमजूपुर |
74.50% |
5 |
अजयगढ |
धरमपुर |
पैकनपुर |
72% |
6 |
अजयगढ |
धरमपुर |
अमिलिहा |
78% |
7 |
अजयगढ |
नयागॉव |
लामी |
84% |
8 |
अजयगढ |
नयागॉव |
गुलाबीपुर |
74% |
9 |
अजयगढ |
नयागॉव |
पंचमपुर |
80% |
10 |
अजयगढ |
नयागॉव |
दुर्गापुर |
81% |
11 |
अजयगढ |
नरदहा |
छनिहापुरवा |
80.50% |
12 |
अजयगढ |
सिद्धपुर |
पुखरा |
77% |
13 |
अजयगढ |
झिन्ना |
बगहा |
78.50% |
14 |
अजयगढ |
इमलहट |
मेंहदीपुरवा |
78% |
15 |
अजयगढ |
पिष्टा |
देवपुर |
100% |
16 |
अमानगंज |
मकरंदगंज सिमरिया |
सकतपुरा |
72% |
17 |
अमानगंज |
मकरंदगंज सिमरिया |
नरेन्द्रपुरा |
60% |
तरमीम कार्य में विवादित आराजियों में सभी पक्षकारों की सुनवाई कर निराकरण किया जा रहा है। संबंधित तहसीलदार एवं सहायक सर्वेक्षण अधिकारियों को विवादित तरमीम प्रकरणों का शीघ्र निराकरण कर तरमीम एवं रिनंबरिंग सूची तैयार करने की कार्यवाही पूर्ण करने के निर्देश दिये गये हैं। उक्त कार्य शीघ्र पूर्ण करा लिया जायेगा। नक्शा तरमीम का कार्य सभी पक्षकारों की सहमति के उपरान्त ही संभव है। अत: उक्त कार्य में विलम्ब के लिये कोई अधिकारी/कर्मचारी दोषी नहीं है।
जगन्नाथ स्वामी जी की रथ यात्रा हेतु राशि आवंटन
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
138. ( क्र. 2802 ) श्री ब्रजेन्द्र प्रताप सिंह : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि क्या पन्ना विधानसभा अंतर्गत कई वर्षों से चली आ रही जगन्नाथ स्वामी जी की रथ यात्रा शासन के आर्थिक सहयोग के अभाव में जनसहयोग से निकाली जाती है? यदि हाँ, तो क्या उक्त रथ यात्रा हेतु पृथक से आवंटन उपलब्ध कराने की घोषणा माननीय मुख्यमंत्री जी की 25 अगस्त, 2024 को पन्ना नगर में श्री कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर की गई घोषणा में शामिल थी? यदि हाँ, तो उक्त घोषणा के पालन में आज दिनांक क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : जी हाँ। अभिलेख अनुसार प्रश्नांकित तिथि को उक्त स्वरूप की घोषणा दर्ज होना नहीं पायी गई। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
औषधि खरीदी में अनियमितता
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
139. ( क्र. 2805 ) श्री विवेक विक्की पटेल : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिविल सर्जन जिला अस्पताल भोपाल द्वारा कारपोरेशन से GEM पोर्टल से खरीदी हेतु कितने वायल की NOC ली गयी? क्या छः माह के लिए केवल 65 वायल की ही मांग थी? फिर GEM से 400 वायल की खरीदी क्यों की गई? स्टेट NRCP नोडल अधिकारी की जानकारी के बिना और बिना कलेक्टर अनुमोदन के लगभग 20 लाख की रेबीज वेक्सिन क्यों खरीदी गयी? कौन-कौन से चिकित्सालयों से कौन-कौन से मरीज रिफर होकर आये? क्या उन चिकित्सालयों में इंजेक्शन अनुपलब्ध थे? विगत 03 वर्षों का स्टोर एकाउंट क्यों नहीं बनाया गया? भौतिक सत्यापन में उक्त एक्सपायरी दवाइयों का उल्लेख क्यों नहीं किया गया? स्टोर कीपर द्वारा 03 वर्षों से वेयरहाउस चेक लिस्ट क्यों नहीं भेजी? समस्त कारणों का विस्तृत उत्तर मय दस्तावेज सहित प्रदान करें। (ख) प्रश्नांश (क) में लाखों रुपयों की एक्सपायर दवाइयों के मिसमेनेजमेंट, उक्त अस्पतालों में उक्त इंजेक्शन की किल्लतो के जिम्मेदार कर्मचारी/अधिकारी पर की गयी कार्यवाही से अवगत करावें? यदि कोई कार्यवाही अब तक नहीं की गयी तो क्यों? कारण सहित विस्तृत जानकारी प्रदान करें। (ग) क्या इस सम्पूर्ण प्रकरण की आर्थिक अपराध अन्वेषण ब्यूरो भोपाल द्वारा जांच प्रस्तावित है? यदि नहीं, तो क्यों एवं कब तक जांच की जायेगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी नहीं। जी हाँ। जी नहीं, E-GEM पोर्टल से केवल कुल 115 वायल क्रय किये गये है। जी नहीं, डॉग बाईट के प्रकरणों में आकस्मिक वृद्धि के दृष्टिगत कार्यालय सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक जिला भोपाल द्वारा कुल राशि रू. 4,62,054/- मूल्य के एंटी रेबीज इम्यूनोग्लोब्यूलिन इंजेक्शन के कुल 115 वायल का उपार्जन किया गया। एंटी रेबीज इम्यूनोग्लोब्यूलिन इंजेक्शन क्रय किये जाने हेतु स्टेट एन.आर.सी.पी. नोडल अधिकारी की अनुमति की आवश्यकता नहीं होती है। क्रय की गई सामग्री का मूल्य राशि रूपये 4,62,054/- है जो सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक को प्रदायित वित्तीय शक्तियों के अधीन है, तदानुसार कलेक्टर के अनुमोदन का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। जिला भोपाल के विभिन्न प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, सिविल अस्पताल, हमीदिया अस्पताल, एम्स चिकित्सालय एवं अन्य अस्पतालों में रैफर होकर जय प्रकाश चिकित्सालय में एंटी रेबीज वैक्सीन एवं इम्यूनोग्लोब्यूलिन इंजेक्शन लगवाने के लिये आते हैं। रोगियों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। जी हाँ। क्रय प्रक्रिया मध्यप्रदेश पब्लिक हेल्थ सर्विसेस के ई-औषधि पोर्टल के माध्यम से होती है तथा क्रयादेश ऑनलाईन जनरेट होते हैं तदानुसार पृथक से स्टोर अकाउंट निर्मित किये जाने का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। एंटी रेबीज इम्यूनोग्लोब्यूलिन इंजेक्शन कालातीत नहीं होने के कारण उक्त औषधि का भौतिक सत्यापन में उल्लेख नहीं है। वर्ष 2024-25 की वेयर हाऊस चैक लिस्ट प्रेषित की जा चुकी है। चैक लिस्ट की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। अन्य जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। (ख) एवं (ग) उत्तरांश (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
रमरमा का पर्यटन स्थल के रूप में विकास
[पर्यटन]
140. ( क्र. 2806 ) श्री विवेक विक्की पटेल : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला बालाघाट अंतर्गत प्रश्नकर्ता के विधानसभा की ग्राम पंचायत रमरमा (पेंदीटोला) प्राकृतिक स्थल है जो कि अब पर्यटन स्थल का रूप ले चुका है जहां म.प्र., महाराष्ट्र एवं छत्तीसगढ़ राज्य के जिलों बालाघाट, गोंदिया, भंडारा, नागपुर, सिवनी, छिंदवाड़ा, मंडला, बैतूल, राजनंदगांव, कवर्धा, रायपुर सहित अन्य बहुत से जिलों के पर्यटक प्रतिदिन हजारों की तादाद में पर्यटन एवं प्राकृतिक मनोरम दृश्यों, झरनों एवं पवित्र शिवलिंग के दर्शन हेतु आते रहते हैं, किंतु विभाग द्वारा इस स्थल को पर्यटन स्थल घोषित कर आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध किए जाने एवं अधोसंरचनात्मक कार्य किए जाने के संबंध में कोई प्रयास नहीं किए गए हैं? यदि हाँ, तो क्यों एवं कब तक इस दिशा में कार्यवाही आरंभ की जाएगी? समय-सीमा बताएं। (ख) क्या उक्त पर्यटन स्थल रमरमा से पेंदीटोला मार्ग अत्यंत सकरा एवं कम चौड़ा होने के कारण अनेक बार उक्त सड़क पर वाहन दुर्घटनाएं एवं हादसे होते रहे हैं जिसमें बहुत से लोगों की दुर्घटना मृत्यु भी हो चुकी है इसके अतिरिक्त महाशिवरात्रि, मकर संक्रांति, नववर्ष एवं अन्य त्यौहारों के अवसर पर कई किलोमीटर का लम्बा जाम लग जाता है जिससे आमजन परेशान होते हैं? यदि हाँ, तो उक्त सड़क के आसपास स्थित शासकीय भूमि को सड़क को चौड़ी किए जाने के लिए उपयोग किया जाएगा? यदि हाँ, तो कब तक समय-सीमा बताएं?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) मध्यप्रदेश पर्यटन नीति 2016 यथा संशोधित नीति 2019 में किसी भी स्थल को पर्यटन स्थल घोषित करने का कोई प्रावधान नहीं है। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) ऐसा कोई कार्य विभाग के समक्ष विचाराधीन नहीं है।
शासकीय भूमि पर अतिक्रमण
[राजस्व]
141. ( क्र. 2809 ) श्री दिनेश राय मुनमुन : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी जिले की सिवनी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत शासकीय/नजूल भूमिओं पर कहां-कहां पर किस-किस खसरा क्रमांक पर किस-किस का अवैध कब्जा/अतिक्रमण है? (ख) उक्त अतिक्रमण को हटाने की क्या-क्या कार्यवाही की गई? यदि कार्यवाही नहीं की गई तो क्यों? (ग) क्या उक्त अतिक्रमण राजस्व अधिकारियों/कर्मचारियों की मिलीभगत से किया गया है? यदि नहीं, तो क्या इसकी जांच करायेगें? (घ) उपरोक्तानुसार क्या सिवनी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत शमशान घाट की भूमिओं पर अवैध रूप से अतिक्रमण किया हुआ है? यदि हां, तो अतिक्रमण हटाने के लिये जिला प्रशासन ने क्या कार्यवाही की और कब तक अतिक्रमण हटा लिया जायेगा?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) सिवनी जिले की सिवनी विधानसभा अंतर्गत शासकीय एवं नजूल भूमियों पर अवैध कब्जा/अतिक्रमण की ग्रामवार, खसरावार, व्यक्तिवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) अतिक्रमण को हटाने हेतु दल का गठन कर अतिक्रमण हटाने की कार्यवाही की गई है। (ग) सिवनी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत उक्त अतिक्रमण राजस्व अधिकारियों/कर्मचारियों की मिलीभगत नहीं रही है। शेष प्रश्नांश उत्पन्न नहीं होता है। (घ) सिवनी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत वर्तमान में शमशान घाट की भूमिओं पर कोई अतिक्रमण नहीं है। शेष प्रश्नांश उत्पन्न नहीं होता है।
सिंचाई परियोजनाओं की जानकारी
[जल संसाधन]
142. ( क्र. 2810 ) श्री दिनेश राय मुनमुन : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी जिले में विभाग द्वारा कौन-कौन सी लघु, मध्यम, वृहद सिंचाई परियोजनाएं, नदी, तालाब, बैराज आदि स्वीकृत है तथा प्रगतिशील है? विकासखण्डवार जानकारी उपलब्ध करायें। कितनी परियोजनाओं की डीपीआर बन चुकी है? कितनी परियोजनाओं की साध्यता को चुकी है? कितनी परियोजनाओं की साध्यता होना शेष है? विस्तृत जानकारी परियोजनावार, विकासखण्डवार उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में उक्त सिंचाई परियोजनाओं का कार्य कब से प्रारंभ है? कार्यादेश की छायाप्रति, तकनीकी एवं प्रशासकीय स्वीकृति, कार्यपूर्णता की दिनांक सहित प्रश्न दिनांक तक हुये कार्य का विवरण एवं ठेकेदार को विगत 05 वर्ष से सिंचाई परियोजनाओं की अभी तक की अद्यतन स्थिति, भुगतान की जानकारी, शेष भुगतान की जानकारी का विवरण माहवार परियोजनावार बतावें। यदि इन योजनाओं का कार्य प्रारंभ नहीं हुआ है, तो कार्य प्रारंभ कब तक कर दिया जावेगा? समय-सीमा बतावें एवं विलंब के लिये दोषी कोन है? दोषी पर क्या कार्यवाही की गई? कृत कार्यवाही की छायाप्रति तथा कार्य प्रारंभ कब से कर दिया जावेगा?
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) सिवनी जिले में 04 वृहद परियोजनाएं क्रमश: पेंच व्यपवर्तन परियोजना, शेर सिंचाई काम्प्लेक्स, मछरेवा सिंचाई काम्प्लेक्स, सनेर बांध एवं 01 मध्यम हर्रई माइक्रो सिंचाई परियोजना तथा 21 लघु तालाब एवं बैराज स्वीकृत एवं प्रगतिशील है। विस्तृत जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के ''प्रपत्र-अ'' अनुसार है। 14 लघु परियोजनाओं की साध्यता स्वीकृति प्राप्त होना, जिनमें से 05 परियोजनाओं की डी.पी.आर. प्रक्रियाधीन होना प्रतिवेदित है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के ''प्रपत्र-ब'' अनुसार है। 45 परियोजनाओं की साध्यता स्वीकृति विभाग स्तर पर परीक्षणाधीन होना प्रतिवेदित है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के ''प्रपत्र-स'' अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में प्रगतिशील सिंचाई परियोजनाओं के कार्यादेश की छायाप्रतियां पुस्तकालय में रखे ''परिशिष्ट-1'' अनुसार है एवं कार्य प्रारंभ की तिथि, तकनीकी स्वीकृति, प्रशासकीय स्वीकृति, कार्य पूर्णता की दिनांक एवं कार्य का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''1'' में दर्शित है तथा विगत 05 वर्षों से सिंचाई परियोजनाओं की अभी तक की अद्यतन स्थिति, माहवार भुगतान एवं शेष भुगतान की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के ''द'' अनुसार है।
मानदेय राशि का भुगतान
[स्कूल शिक्षा]
143. ( क्र. 2812 ) श्री सुनील उईके : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वर्ष 2018 से 2020 के मध्य मध्यप्रदेश के सभी अशासकीय विद्यालयों के अप्रशिक्षित शिक्षकों को प्रशिक्षित करने डी.एल.एड. कोर्स के लिए एनआईओएस (NIOS) दिल्ली द्वारा एक कार्यक्रम चलाया गया था? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या इसके लिए राज्य शिक्षा केन्द्र भोपाल को समन्वयक बनाकर समस्त जिलों में चुनिंदा विद्यालयों को 2 वर्षीय डीएलएड कोर्स का अध्ययन केन्द्र बनाया गया था। इस कार्य के लिए जिलों में कोआर्डिनेशन के लिए प्रत्येक जिले की डाइट को समन्वय संस्था तथा अप्रशिक्षित शिक्षकों के अध्ययन कक्षाओं हेतु चुनिंदा उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों को अध्ययन केन्द्र बनाया गया था, जिन्हें इस कार्य के एवज में निर्धारित दर पर मानदेय दिया जाना था। जिसका डी.एल.एड प्रथम वर्ष का मानदेय का भुगतान किया जा चुका है। (ग) क्या द्वितीय वर्ष की मानदेय राशि जिलों के अध्ययन केंन्द्रों को दी जा चुकी है? यदि नहीं, तो क्यो? यदि हाँ, तो केन्द्र द्वारा शिक्षा केन्द्र भोपाल को उपलब्ध कराई गई डीएलएड द्वितीय वर्ष की मानदेय राशि वितरण का विवरण अध्ययन केन्द्रवार प्रदान करें एवं यह राशि राज्य शिक्षा केन्द्र में किसके खाते में आई है? कब से आई है और कितनी राशि आई है? जानकारी दें। (घ) 4 वर्ष बीत जाने के बाद भी राशि नहीं दी गई है? यह राशि कब तक अध्ययन केन्द्रों की दी जाना प्रस्तावित है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) एवं (ख) जी हाँ। (ग) जी हाँ। अध्ययन केन्द्रवार विवरण की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। राशि 'एनआईओएस-डीएलएड कार्यक्रम राज्य शिक्षा केन्द्र स्टेट' खाते में प्राप्त हुई थी। एन.आई.ओ.एस. द्वारा माह मई-जून 2022 में रू. 16,56,19,480 की राशि उपलब्ध कराई थी। (घ) एन.आई.ओ.एस. से अध्ययन केन्द्रवार राशि प्राप्त होने पर संबंधित अध्ययन केन्द्रों को उपलब्ध कराई गई है।
अतिथि शिक्षकों की भर्ती
[स्कूल शिक्षा]
144. ( क्र. 2817 ) श्री अमर सिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राजगढ़ जिले की विधानसभा राजगढ़ में अतिथि शिक्षकों की भर्ती की गई है यदि हाँ, किस नियम से बतावें। (ख) राजगढ़ जिले की विधानसभा राजगढ़ में किन-किन शालाओं में अतिथि शिक्षकों की भर्ती की गई है? नाम, पदनाम, शाला का नाम, शैक्षणिक योग्यता एवं स्कोर कार्ड सहित बतावें। (ग) क्या उक्त अतिथि शिक्षकों की भर्ती में डी.एल.एड. अथवा बी.एड. की योग्यता आवश्यक नहीं है यदि नहीं है तो ऐसे कितने अतिथि शिक्षक है जो डी.एल.एड. अथवा बी.एड. योग्यताधारी नहीं है नाम, पदनाम, शैक्षणिक योग्यता सहित बतावें। (घ) जब अतिथि शिक्षकों की भर्ती में डी.एल.एड. अथवा बी.एड. की योग्यता आवश्यक नहीं है तो शासन द्वारा सहित अनुकम्पा नियुक्ति में डी.एल.एड. अथवा बी.एड. की योग्यता क्यों आवश्यक है? (ड.) क्या शासन अनुकम्पा नियुक्ति में डी.एल.एड. अथवा बी.एड. की बाध्यता को समाप्त करेगा यदि हाँ, तो कब तक और यदि नहीं, तो क्यों नहीं?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''01'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''02'' अनुसार है। (ग) अतिथि शिक्षक की भर्ती नहीं की जाती है। शाला में आवश्यकता के आधार पर अतिथि शिक्षक आमंत्रित किये जाते है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''03'' अनुसार है। (घ) नि:शुल्क और बाल शिक्षा का अधिनियम 2009 के अनुसार शिक्षकों की भर्ती के लिए व्यावसायिक योग्यता अनिवार्य है। (ड.) जी नहीं उत्तरांश (घ) के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के न्यायालयीन प्रकरण्ा
[स्कूल शिक्षा]
145. ( क्र. 2818 ) श्री अमर सिंह यादव : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजगढ़ जिले के शिक्षा विभाग में प्रश्न दिनांक तक कितने न्यायालयीन प्रकरण्ा प्रचलित है? (ख) क्या राजगढ़ जिले की विधानसभा राजगढ़ के कोई शिक्षक ऐसे है, जिनके द्वारा उच्च न्यायालय में प्रकरण लगाये गये है, यदि हाँ, तो उनके नाम, पदनाम, शाला का नाम, प्रकरण लगाये जाने के कारण सहित जानकारी दें। उक्त प्रकरण प्रश्न दिनांक को किस स्थिति में बतावें। (ग) क्या राजगढ़ विधानसभा में ऐसे कोई प्रकरण है जिनमें अपील की जाना है यदि हाँ, तो उसका नाम, पदनाम व अपील किये जाने के कारण्ा सहित बतावें। (घ) क्या शासन द्वारा माननीय न्यायालय में अपील किये जाने की अनुमति प्रदान की गई है यदि हाँ, तो क्या उनमें अपील की जा चुकी है और यदि नहीं, तो उनमें शासन द्वारा अपील किये जाने की अनुमति नहीं दिये जाने का क्या कारण है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) अद्यतन 120 न्यायालयीन प्रकरण प्रचलन में है। (ख) जी हाँ। विस्तृत जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''अ'' अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''ब'' अनुसार है। (घ) प्रकरण में अपील की कार्यवाही प्रचलन में है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
राजस्व विभाग का वेब पोर्टल
[राजस्व]
146. ( क्र. 2821 ) श्री सचिन सुभाषचंद्र यादव : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) म.प्र. सरकार को पिछले पांच वर्षों में केन्द्र सरकार से डिजीटल कृषि मिशन, किसान पंजीयन, डिजीटल गिरदावरी, डिजीटल भूमि रिकार्ड आदि कार्यों के लिए कोई राशि प्राप्त हुई? कितनी प्राप्त होना शेष है? वर्षवार विवरण देवें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार म.प्र. राज्य कोष से इनक कार्यों पर क्या कोई राशि व्यय की गई है, अगर हाँ तो केन्द्र एवं राज्यांश की पृथक-पृथक वर्षवार जानकारी देवें। (ग) म.प्र. सरकार के शासकीय पोर्टल पर भूलेख, वेब जीआईएस एवं सार पोर्टल, किसान पंजीयन पोर्टल एवं जमीन रिकार्ड से संबंधित समस्त पोर्टल का कार्य किसी निजी कंपनी को दिया गया है, अगर हाँ तो क्या भूमि के शासकीय रिकॉर्ड को निजी कम्पनियों को दिए जाने हेतु संविधान एवं राजपत्र में कोई नियम बनाये गए या प्रकाशित किये गए? अगर हाँ तो विवरण देवें। (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार इन पोर्टलों पर वर्ष 2015 से प्रश्न दिनांक तक कितनी राशि व्यय की गई? वर्षवार विवरण देवें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) डिजिटल क्रॉप सर्वेक्षण हेतु किसान कल्याण तथा कृषि विकास की राशि का विवरण जानकारी संलग्न परिशिष्ट-1 अनुसार तथा डिजिटल इंडिया लैंड रिकॉर्ड मॉर्डनाइजेशन प्रोग्राम के अंतर्गत राजस्व विभाग की राशि का विवरण जानकारी संलग्न परिशिष्ट-2 अनुसार है। (ख) जी हाँ। जानकारी संलग्न परिशिष्ट -1 अनुसार है। (ग) मध्य प्रदेश सरकार के शासकीय पोर्टल पर डाटा संधारण एवं संचालन का कार्य विभागीय अमले द्वारा किया जा रहा है। शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता है। (घ) वर्ष 2015 से प्रश्न दिनांक तक पोर्टल के संचालन पर वित्तीय वर्ष 2024-2025 में राशि रूपये 13.8950 करोड़ का व्यय हुआ हैl
मंदिरों एवं घाटों का निर्माण
[धार्मिक न्यास और धर्मस्व]
147. ( क्र. 2822 ) श्री सचिन सुभाषचंद्र यादव : क्या राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) धार्मिक एवं पौराणिक मान्यता वाली मां नर्मदा के तटों पर वर्षों पुराने कितने मंदिर हैं? जानकारी दें। (ख) क्या इन पौराणिक मान्यताओं के मंदिरों को सहेजने एवं संरक्षित करने के लिए सरकार की कोई योजना प्रचलन में है? यदि हाँ, तो विवरण दें। (ग) प्रश्नकर्ता विधानसभा क्षेत्र कसरावद में मलगॉव से लेकर भोईन्दा घाटवड़िया तक वर्षों पुराने मंदिरों को कब तक संरक्षित और सौंदर्यीकरण किये जाने की योजना है? (घ) क्या विधानसभा क्षेत्र कसरावद में मॉ नर्मदा के पावन घाट नावड़ाटौड़ी, बलगांव, खलटाका, को विकसित करने के लिए वर्ष 2025-26 के बजट में सम्मिलित कर स्वीकृति प्रदान की जावेगी?
राज्य मंत्री, धार्मिक न्यास और धर्मस्व ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) कलेक्टर जिला खरगौन से प्राप्त जानकारी अनुसार मॉ नर्मदा के तटों पर वर्षों पुराने कुल 32 मंदिर हैं। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) शासन संधारित मंदिरों के जीर्णोद्धार कार्य हेतु जिले द्वारा आयुक्त के माध्यम से नियमानुसार प्रस्ताव प्राप्त होने पर कार्य की औचित्यता एवं बजट की उपलब्धता के आधार पर राशि आवंटित की जाती है। (ग) विभाग अंतर्गत कोई प्रस्ताव प्राप्त नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) विभाग अंतर्गत घाट निर्माण एवं विकास संबंधी कार्य किये जाने का प्रावधान नहीं होने से प्रश्न उदभूत नहीं होता।
नामान्तरण, बंटवारा एवं सीमांकन के लंबित प्रकरण
[राजस्व]
148. ( क्र. 2824 ) श्री राजन मण्डलोई : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बड़वानी जिले में नामान्तरण, बटवारा एवं सीमांकन के कितने प्रकरण निराकरण/आवेदन निराकरण हेतु लंबित है? विधानसभावार/तहसीलवार जानकारी देवें। (ख) क्या प्रश्नांश (क) में नामान्तरण, बटवारा एवं सीमांकन के कितने प्रकरण/आवेदन जमा करने के उपरान्त, प्राप्त प्रकरण/ आवेदन का निराकरण हेतु कोई समय-सीमा निर्धारित है? (ग) बड़वानी जिले अंतर्गत किन-किन तहसीलों में कितने प्रकरण पंजीबद्ध है जो विभाग की निर्धारित समय-सीमा में निराकृत नहीं हुए, तहसीलवार/ संख्या देवें। (घ) बड़वानी विधानसभा अंतर्गत के तहसीलदार/नायब तहसीलदार कार्यालयों में ऐसे कितने नामान्तरण, बटवारा एवं सीमांकन प्रकरण लंबित है जिनका निराकरण नहीं हुआ? कारण सहित नाम/ग्राम का नाम व तहसील का नाम सहित जानकारी देवें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जिला बड़वानी अंतर्गत नामान्तरण, बटवारा एवं सीमांकन प्रकरण निराकरण/आवेदन निराकरण हेतु लंबित प्रकरण की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "अ" अनुसार है। (ख) जी हाँ। राजस्व मामले में आर.सी.एम.एस. प्रकरणों का निराकरण करने की समय-सीमा निर्धारित है। जो निम्न है-
नामांतरण |
अविवादित 30 दिवस (विवादित प्रकरण 5 माह) |
बटवारा |
अविवादित 90 दिवस (विवादित प्रकरण समय -सीमा नहीं ) |
सीमांकन |
45 दिवस |
(ग) जिला बड़वानी अंतर्गत कोई भी प्रकरण समय-सीमा से बाहर नहीं है। सभी प्रकरण समय-सीमा में निराकृत किये जा रहे है। (घ) जिला बड़वानी अंतर्गत विधानसभा बड़वानी की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-"ब"अनुसार है। विधानसभा बड़वानी अंतर्गत तहसीलदार/नायब तहसीलदार कार्यालयों में नामांतरण, बटवारा, सीमांकन के प्रकरण समय-सीमा में होने से लंबित है।
स्वास्थ्य केन्द्रों में अमला एवं पदपूर्ति
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
149. ( क्र. 2825 ) श्री राजन मण्डलोई : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बड़वानी जिले में कितने आरोग्यमय केन्द्र, सामुदायिक प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र सामुदायिक उप स्वास्थ्य केन्द्र स्थापित है? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार, केन्द्रों हेतु कितना अमला स्वीकृत है? स्वीकृत पदों के विरूद्ध कौन-कौन से पद रिक्त है? पदवार जानकारी उपलब्ध कराये। रिक्त पदों की पूर्ति कब तक कर दी जायेगी? (ग) संबंधित केन्द्रों पर परीक्षण हेतु लैब एवं लैब टेक्निशियन की उपलब्धता है? यदि नहीं, तो क्यों? कब तक स्वास्थ्य केन्द्रों पर उपलब्धता सुनिश्चित करा दी जायेगी? (घ) उपरोक्त स्वास्थ्य केन्द्रों पर चिकित्सा/उपचार की कौन-कौन सी सुविधाएं एवं क्या-क्या उपकरण उपलब्ध है तथा कौन-कौन से उपकरण/मशीन की आवश्यकता है? केन्द्रवार जानकारी उपलब्ध कराये।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) बड़वानी जिले में 358 आरोग्यम केन्द्र, 31 प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र (शहरी एवं ग्रामीण), 327 उप स्वास्थ्य केन्द्र स्थापित है। (ख) आरोग्य केन्द्रों हेतु स्वीकृत तथा रिक्त पदों की पदवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। रिक्त पदों की भर्ती प्रक्रिया सतत् है, निश्चित दिनांक बताया जाना संभव नहीं है। (ग) भारत सरकार के निर्देशों के अनुक्रम में लैब टेक्निशियन की उपलब्धता प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र (शहरी एवं ग्रामीण) पर की गई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) स्वास्थ्य केन्द्रों पर चिकित्सा/उपचार की सुविधाएं एवं उपकरण की उपलब्धता की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। उपकरण/मशीन की आवश्यकता की केन्द्रवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार।
राजस्व की भूमि पर अतिक्रमण
[राजस्व]
150. ( क्र. 2827 ) डॉ. विक्रांत भूरिया : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) झाबुआ जिले के नगर पालिका और नगर परिषद द्वारा, राजस्व/नजूल की भूमि का व्यवसायिक उपयोग हेतु टीन-शेड की दुकान का निर्माण कर, अतिक्रमण करके दी जा रही है। इसके संबंध में विभाग ने भू-राजस्व की किस धारा के तहत मंजूरी दी है? (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में यदि विभाग ने कोई मंजूरी नहीं दी, तब अतिक्रमण हटाने हेतु, की गई कार्यवाही की विस्तृत जानकारी दी जाए।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) कोई अनुमति जारी नहीं की गई है। (ख) अनुविभागीय अधिकारी (रा.) अनुभाग झाबुआ के पत्र क्रमांक 6260/रीडर/2024 दिनांक 28/12/2024 के द्वारा नगर पालिका झाबुआ को उक्त टीन-शेड तत्काल हटाए जाने के निर्देश दिए गए है। इस संबंध में स्मरण पत्र क्रमांक 1112/रीडर/2025 दिनांक 28.02.2025 द्वारा उक्त टीन-शेड हटाए जाने के संबंध में पुनः निर्देशित किया गया। पत्र की छायाप्रति संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
उद्योग-व्यवसाय हेतु लीज पर दी गई भूमि
[राजस्व]
151. ( क्र. 2828 ) श्री प्रताप ग्रेवाल : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) 1956-57 के राजस्व अभिलेख में भूमि शासकीय दर्ज हो तथा बाद में वह निजी नाम पर दर्ज हो गई क्या उस जमीन के रजिस्टर्ड विक्रय विलेख पत्र के बाद नामांतरण किया जायगा या नहीं यदि नहीं, तो क्यों? (ख) उज्जैन तथा इन्दौर संभाग में ऐसे कितने नामांतरण के प्रकरण लंबित जिनमे 1956-57 में जमीन शासकीय दर्ज थी लेकिन बाद के वर्षों में निजी नाम पर दर्ज हो गई एवं उसके बाद रजिस्टर्ड विक्रय विलेख पत्र के बाद भी उसके नामांतरण से इंकार किया गया जिलेवार बतावें। (ग) रतलाम में गोल्ड कॉम्पलेक्स के लिये आवंटित जमीन खसरा नं. 106/2 में से रकबा 1.6 हेक्टर वर्ष 1956-57 में निजी नाम पर दर्ज थी उसे शासकीय विभाग के नाम पर किस वर्ष में दर्ज किया गया तथा क्यों किया गया उस संबंधी प्रकरण के समस्त दस्तावेज तथा आदेश की प्रतिया देवें। (घ) उज्जैन तथा इन्दौर संभाग में जो जमीन आजादी के पूर्व किसी उद्योग-व्यवसाय के मकसद से लीज पर दी गई थी तथा राजस्व अभिलेख में 1956-57 में वह शासकीय दर्ज थी उसकी सूची रकबा, खसरा, गॉव, लीज पर दिये गये व्यक्ति का नाम लीज अवधि समाप्त होने की की दिनांक/वर्ष सहित सूची दें तथा बतावें कि उसमे से कौन-कौन सी जमीन जनवरी 2025 की स्थिति में निजी नाम पर दर्ज हो गई और क्यों हो गई?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) ऐसी भूमियाँ जो वर्ष 1956-57 या राजस्व अभिलेख में शासकीय दर्ज थी और बाद में निजी नाम पर दर्ज हुई, उन भूमियों के संबंध में विक्रय होने की दशा में नामांतरण हेतु प्रस्तुत आवेदन पत्र पर प्रस्तुत दस्तावेजी प्रमाणों के आधार पर म.प्र. भू-राजस्व संहिता 1959 में निहित प्रावधानों के तहत विधि अनुरूप निराकरण किया जाता है। (ख) रतलाम, उज्जैन की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'अ' अनुसार है। दोनों संभाग के शेष जिलों में जानकारी निंरक है। (ग) वर्ष 1956-57 में सर्वे क्रमांक 106/2 अस्तित्व में नहीं था। भूमि मूल सर्वे 106 जिसका रकबा 12 बीघा 4 बिसवा जामिन खां पिता नन्हे खां के नाम पर दर्ज थी। वर्ष 1962 में सर्वे क्रमांक 106/2 रकबा 11 बीघा 11 बीसवा खसरें में पीडब्ल्यूडी के नाम पर दर्ज है जो लोक निर्माण विभाग द्वारा डिग्री कालेज के विस्तारीकरण हेतु अधिग्रहित क्रमांक 106 के वर्ष 1958 से उपलब्ध नहीं होने के कारण किया गया था। सर्वे 1963 तक के खसरे आदेश का विवरण उपलब्ध कराने में कठिनाई है। उपलब्ध दस्तावेज जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'ब' अनुसार है। (घ) रतलाम, उज्जैन एवं शाजापुर 9 की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'स' अनुसार है। दोनों संभाग के शेष जिलों में जानकारी निंरक है।
बजट की स्वीकृति
[पर्यटन]
152. ( क्र. 2829 ) श्री प्रताप ग्रेवाल : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) माननीय मुख्यमंत्री कार्यालय के पत्र क्रमांक 4425/सी.एम.एस./एम.एल.ए./196/2024 दिनांक 09.09.2024 के माध्यम से अमझेरा स्थित मॉ अमका झमका मंदिर (रूक्मणी हरण स्थल), राज राजेश्वर मंदिर को तीर्थ के रूप में विकसित करने एवं अमर शहीद महाराव बख्तावर सिंह जी के महल परिसर, लालगढ़ किले का जीर्णोद्धार करने एवं शहीद गैलरी निर्माण के लिए विभाग को प्रेषित किया गया था उस पर क्या कार्यवाही की गई, समस्त नोटशीट एवं दस्तावेज उपलब्ध करावें। (ख) धार जिले में 1 जनवरी, 2021 से प्रश्न दिनांक तक पर्यटन विभाग द्वारा कितने कार्य स्वीकृत किए गए? कौन-कौन से कार्य में कितनी-कितनी राशि स्वीकृत की गई, योजनावार, मदवार, कार्य के नाम, तकनीकी स्वीकृति, प्रशासकीय स्वीकृति, कार्यादेश की विधानसभावार विस्तृत जानकारी देवें एवं आवंटित की गई राशि के विरूद्ध कितनी राशियां किस-किस निर्माण/विकास कार्य पर व्यय की गई, कितनी राशि शेष है, योजनावार, मदवार जानकारी देवें। (ग) धार जिले को वर्ष 2020 से प्रश्न दिनांक तक विकास कार्य हेतु कितना बजट स्वीकृत किया गया, पर्यटन गतिविधि के उन्नयन हेतु क्या-क्या कार्य किए जा रहे है, विधानसभावार जानकारी देवें। (घ) धार जिले में पर्यटन विभाग की विभागीय संरचनाएं क्या है? पर्यटन विभाग के अंतर्गत कौन-कौन सी सम्पत्तियां, प्राचीन धरोवर, संस्थाएं, इकाइयां सम्मिलित है उन सभी संस्था एवं इकाइयों की तहसीलवार जानकारी उपलब्ध करावें।
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) सरदारपुर विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत अमका-झमका मंदिर व राज राजेश्वरी मंदिर को विकसित करने की डी.पी.आर. तैयार की जा रही है, अमर शहीद महाराज बख्तावर सिंह जी महल परिसर के विकास कार्य की निविदा प्रक्रिया प्रचलन में है लालागढ़ किला एवं शहीद गैलरी को संरक्षित करने का कार्य विभाग के कार्य क्षेत्र में नहीं आता है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ग) जिलेवार बजट प्राप्त नहीं होता है। शेष जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (घ) 1. होटल मालवा रिसोर्ट, माण्डू में संचालित है जो कि पर्यटको को ठहरने व भोजन आदि की सुविधा मुहैया कराता है। 2. मालवा रिट्रीट, माण्डू इकाई को 30 वर्ष की लीज पर दिनांक 26/06/2023 को निविदा के माध्यम से अनुबंध निष्पादित किया जाकर सफल निविदाकर्ता को आधिपत्य सौंपा गया है।
विलंब करने वाले अधिकारियों पर कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
153. ( क्र. 2834 ) श्री कमलेश्वर डोडियार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला रतलाम के कितने अध्यापक/सहायक अध्यापक/वरिष्ठ अध्यापक का वर्ष 2018 से प्रश्न दिनांक तक शिक्षा विभाग में संविलियन नहीं हुआ है? सूची उपलब्ध करायें। संविलियन न होने का कारण स्पष्ट करें। (ख) यदि किसी अध्यापक/सहायक अध्यापक/वरिष्ठ अध्यापक की विभागीय जांच या अन्य जांच के कारण संविलियन नहीं किया गया है तो जिन अध्यापक/सहायक अध्यापक/वरिष्ठ अध्यापक की विभागीय जांच या अन्य प्रकरण समाप्त हो चुके है, उनके संविलियन कब तक किये जायेंगे? विलंब करने वाले अधिकारियों पर क्या कार्यवाही की जायेगी और कब तक? जानकारी पृथक-पृथक बतावें। (ग) कितने शैक्षणिक कर्मचारी अन्य विभाग एवं शिक्षा विभाग में गैर शैक्षणिक कार्य में संलग्न है। सूची पृथक-पृथक देवें। शिक्षा विभाग द्वारा समय-समय पर आदेश जारी कर गैर शैक्षणिक कार्य में लगे हुए शैक्षणिक कर्मचारियों का संलग्नीकरण समाप्त कर मूल संस्था में वापिस किया जाने हेतु निर्देशित किया है। क्या जिला कलेक्टर द्वारा उक्त आदेशों का पालन किया गया है अथवा नहीं? यदि नहीं, तो कब तक शैक्षणिक कर्मचारियों का गैर शैक्षणिक कार्य से संलग्नीकरण समाप्त किया जायेगा? (घ) शैक्षणिक कर्मचारियों का नियम विरूद्ध गैर शैक्षणिक कार्य में संलग्नीकरण करने वाले अधिकारियों के खिलाफ क्या कार्यवाही की जायेगी एवं कब तक?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) विभागीय जांच या अन्य जांच समाप्त होने के पश्चात प्रकरण का परीक्षण कर दण्ड की अवधि समाप्त होने के उपरांत जिला स्तरीय पात्रता समिति से प्राप्त अनुशंसा के आधार पर नियुक्तिकर्ता अधिकारी स्तर से नियमानुसार आगामी कार्यवाही की जाती है। अध्यापक संवर्ग से नवीन संवर्ग में सुसंगत पदों पर नियुक्ति एक सतत् प्रक्रिया है, समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। अतः शेषांश का प्रश्न अपस्थित नहीं होता है। (ग) वर्तमान में जिला रतलाम अंतर्गत शैक्षणिक संवर्ग का कोई भी लोक सेवक गैर शैक्षणिक कार्य में संलग्न नहीं है। अतः शेषांश का प्रश्न अपस्थित नहीं होता है। (घ) उत्तरांश (ग) के क्रम में प्रश्न अपस्थित नहीं होता है।
संचालित चेक पोस्ट बेरियर
[परिवहन]
154. ( क्र. 2835 ) श्री कमलेश्वर डोडियार : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला रतलाम में वर्ष 2015 से प्रश्न दिनांक तक परिवहन विभाग द्वारा किन-किन स्थानों पर चेक पोस्ट बेरियर संचालित है? जानकारी पृथक-पृथक वर्षवार देवें। (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित बेरियर पर कब से किन-किन विभागीय कर्मचारियों की पदस्थापना की गई है? नाम व पदनाम सहित जानकारी पृथक-पृथक बतावें। (ग) क्या उक्त बेरियर पर निजी कर्मचारियों की भी नियुक्ति की गई है? यदि हाँ, तो कब से और किस आदेश से? (घ) उक्त चेक पोस्ट बेरियर पर वर्ष 2015 से प्रश्न दिनांक तक कितने राजस्व की प्राप्ति हुई है? जानकारी पृथक-पृथक वर्षवार बतावें।
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) वर्ष 2015 में रतलाम जिले में बांसवाड़ा से रतलाम मार्ग पर चैक पोस्ट सैलाना एवं प्रतापगढ़ से रतलाम मार्ग पर चैक पोस्ट पिपलौदा संचालित थे। तत्पश्चात् शासन के आदेश क्रमांक 925/1429257/2024/आठ दिनांक 30.06.2024 के द्वारा प्रदेश के समस्त चैक पोस्टों का संचालन दिनांक 01 जुलाई, 2024 से बंद कर दिया गया है। (ख) प्रश्नांश (क) के उत्तर में उल्लेखित बैरियर पर विभागीय कर्मचारियों की पदस्थापना संबंधी जानकारी संलग्न परिशिष्ट-अ अनुसार है। (ग) जी नहीं, शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जानकारी संलग्न परिशिष्ट -ब अनुसार है।
अल्पसंख्यक विद्यालयों में शासन की सुविधाएं
[स्कूल शिक्षा]
155. ( क्र. 2837 ) श्री दिलीप सिंह परिहार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) नीमच, मंदसौर, रतलाम जिलों में ऐसे कितने कॉन्वेंट और अन्य स्कूल हैं? जिन्हें अल्पसंख्यक विद्यालयों के नाम पर शासन की सुविधाएं प्राप्त हैं। (ख) प्रश्नांश (क) संदर्भित अल्पसंख्यक विद्यालयों के नाम पर शासन की सुविधाओं के लिए विद्यालय में कुल कितने विद्यार्थी और किस अनुपात में अल्पसंख्यक होने चाहिए तथा कितने विद्यार्थी सामान्य होने चाहिए? (ग) स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा प्रश्नांश (क) एवं (ख) संदर्भित विद्यालयों में अल्पसंख्यक बच्चों की संख्या की जांच 1 जनवरी, 2015 के पश्चात कब-कब और किस-किस सक्षम अधिकारी ने की? इसमें क्या कमियां पाई गईं? जांच प्रतिवेदन की रिपोर्ट दें और बताएं कि अल्पसंख्यक विद्यालयों के नाम पर शासन से राशि लेने वाले इन विद्यालयों के खिलाफ किस तरह की कार्यवाही की गई?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) मंदसौर, नीमच एवं रतलाम जिलों में ऐसे कान्वेंट एवं अन्य अल्पसंख्यक विद्यालय संचालित नहीं हैं, जिन्हें अल्पसंख्यक विद्यालयों के नाम पर शासन की सुविधायें प्राप्त है, किन्तु मंदसौर जिले में 05, नीमच जिले में 04 एवं रतलाम जिले में 19 संस्थाओं को अल्पसंख्यक दर्जा होने आर.टी.ई. अंतर्गत नि:शुल्क प्रवेश दिये जाने से छूट प्राप्त है। (ख) अल्पसंख्यक शैक्षणिक संस्थाओं में प्रवेश हेतु विद्यार्थियों का अनुपात निर्धारित नहीं है। (ग) जानकरी निरंक है।
मेडिकल कॉलेज खोले जाना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
156. ( क्र. 2839 ) श्री अजय अर्जुन सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सरकार ने सीधी में मेडिकल कॉलेज खोलने की घोषणा की है? (ख) यदि हाँ, उपरोक्त किस दिनांक को गई थी? (ग) प्रश्न दिनांक तक सीधी में मेडिकल कॉलेज खोलने के लिये क्या-क्या कार्यवाही की गई? (घ) सीधी में कब तक मेडिकल कॉलेज खोला जा सकेगा?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। (ख) ग्राम लहिया जिला सीधी में दिनांक 17/02/2023 को घोषणा की गई। (ग) जिला सीधी में मेडिकल कॉलेज खोले जाने हेतु दिनांक 05/07/2023 को सैद्धांतिक सहमति प्रदान की गई एवं दिनांक 25/08/2023 को बाउंड्रीवॉल हेतु राशि रूपये 400.18 लाख की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की जा चुकी है, जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। वर्तमान में पी.पी.पी. मोड अंतर्गत चिकित्सा महाविद्यालय संचालित किये जाने हेतु निविदा की प्रक्रिया प्रचलन में। (घ) समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं।
लैब असिस्टेंट पद की अर्हताएं
[स्कूल शिक्षा]
157. ( क्र. 2841 ) श्री दिलीप सिंह परिहार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या लैब असिस्टेंट पद पर नियुक्त कर्मचारियों को शैक्षणिक कार्य नहीं दिया जाता है? यदि हां, तो लैब असिस्टेंट अनिवार्यता में बी.एड./डी.एड. की आवश्यकता क्यों है? (ख) प्रश्नांश (क) संदर्भित क्या माननीय न्यायालय, हाइकोर्ट इंदौर ने दिनांक 23.09.2009 द्वारा लैब असिस्टेंट पद वाले कर्मचारियों से शैक्षणिक कार्य न कराने को लेकर विभाग को निर्देश दिए है? यदि हां, तो माननीय न्यायालय के निर्देश पर क्या कार्यवाही की गई? (ग) क्या वर्तमान में नवीन लैब असिस्टेंट की नियुक्तियों में बी.एड./डी.एड. की अनिवार्यता है? वर्तमान में अनिवार्यता को लेकर कितने प्रकरण न्यायालय में लंबित है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) वर्तमान भर्ती नियमों में लैब असिस्टेंट का कोई पद नहीं है। प्रयोगशाला शिक्षक पद का पदनाम प्राथमिक शिक्षक विज्ञान/सहायक शिक्षक विज्ञान किया गया है। यह पद प्राथमिक शिक्षक संवर्ग का होने से शैक्षिणक पद की श्रेणी में आता है। निःशुल्क और अनिवार्य बाल शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 के अनुसार प्राथमिक शिक्षक संवर्ग हेतु व्यावसायिक योग्यता अनिवार्य है। (ख) उत्तरांश (क) के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश (क) अनुसार।
गरीब परिवारों को भू-अधिकार मालिकाना
[राजस्व]
158. ( क्र. 2846 ) श्री मुकेश मल्होत्रा : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या श्योपुर जिले में शासकीय भूमि हजारों बीघा/एकड़ भूमि पर भू-माफिया प्रभावशाली लोगों ने अवैध कब्जा कर रखा है? यदि हाँ, तो तहसीलवार सूची बनाकर जानकारी प्रदान करावें। (ख) क्या श्योपुर जिले में ग्रामीण अंचल में हजारों गरीब तबके के लोग निवास करते हैं जिनके पास न कृषि भूमि है, न अन्य कोई भूमि है? (ग) क्या प्रश्नांश (क) का उत्तर जनता के हित से जुड़ा है तो विभाग और सरकार शासकीय भूमि में से ग्रामीण क्षेत्रों में निवासरत गरीब वर्ग के व्यक्तियों को 9- 9 बीघा/एकड़ शासकीय भूमि के भू-अधिकार मालिकाना हक प्रदान करने के लिए प्रक्रिया अपनाई जाएगी? यदि हाँ, तो कब तक नहीं तो क्यों नहीं कारण बतावें?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) श्योपुर जिला अंतर्गत शासकीय भूमि के 3413.196 हे. रकबा पर अन्य व्यक्तियों का कब्जा है। तहसीलवार जानकारी निम्नानुसार है-
क्र. |
तहसील |
शासकीय भूमि (हे.) |
1 |
श्योपुर |
0 |
2 |
बड़ौदा |
375 |
3 |
कराहल |
2518.196 |
4 |
विजयपुर |
520 |
5 |
बीरपुर |
0 |
योग |
3413.196 |
(ख) जिला श्योपुर अंतर्गत कुल भूमिस्वामी कृषकों की संख्या 354255 है। (ग) म.प्र. नजूल भूमि निर्वर्तन निर्देश 2020 के अध्याय-सात अंतर्गत भूमिहीनों को भूमिस्वामी हक में कृषि प्रयोजन के लिए भूमि के आवंटन के प्रावधान है। यह कार्य राज्य शासन के द्वारा कार्यकारी निर्देश जारी किए जाने पर किया जावेगा।
संविदा शिक्षकों की भर्ती
[स्कूल शिक्षा]
159. ( क्र. 2850 ) श्री सिद्धार्थ सुखलाल कुशवाहा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सतना एवं मैहर जिले में हायर सेकेण्ड्री, हाई स्कूल, माध्यमिक, प्राथमिक स्कूल के सभी वर्गों के शिक्षकों के कितने-कितने पद रिक्त हैं? स्कूलवार/पदवार/वर्गवार सूची उपलब्ध करायें। (ख) मध्यप्रदेश में वर्ष 2018 के पश्चात प्राथमिक, माध्यमिक एवं उच्च माध्यमिक शिक्षकों की भर्ती हेतु पात्रता परीक्षा/चयन परीक्षा आयोजित की गई थी, उसमें कुल कितने छात्रों ने प्रतियोगी परीक्षा में भाग लिया था? कितने छात्र उत्तीर्ण हुये थे? उत्तीर्ण अभ्यर्थियों में कितने लोगों को भर्ती किया जा चुका है? कितने लोगों को भर्ती किया जाना शेष है, परीक्षावार नियुक्त अभ्यार्थियों की संख्यात्मक जानकारी उपलब्ध करावें?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''एक'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''दो'' अनुसार है।
विभाग को बजट आवंटन की जानकारी
[मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास]
160. ( क्र. 2852 ) श्री मधु भगत : क्या राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विगत 5 वर्षों से विभाग में किस-किस कार्य हेतु कितनी-कितनी राशि का आवंटन शासन/प्रशासन द्वारा समस्त जिले में प्राप्त हुआ? उक्त राशि में से किस-किस को कितनी-कितनी राशि का भुगतान किस तिथि को किस कार्य हेतु किया गया, समस्त प्रकार के हितग्राहियों को उनके कार्य सहित तथा निर्माण कार्यों हेतु भुगतान की गई राशि का ब्यौरा देवें? (ख) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित भुगतान की गई राशि किस माध्यम से RTGS/ड्रॉफ्ट/कैश/अन्य माध्यम पूर्ण विवरण के साथ बिल, वाऊचर, कार्यादेश सहित हितग्राही के नाम बतायें तथा सत्य प्रतिलिपि उपलब्ध करावें? (ग) समस्त बालाघाट जिले में कौन-कौन लोकसेवक किस कार्यालय में पदस्थ/ कार्यरत कब से है तथा वर्तमान में कार्यरत संस्थान का नाम बतायें? नियुक्ति दिनांक सहित अटैचमेन्ट संस्था आदेश सहित बताएं।
राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास ( श्री नारायण सिंह पंवार ) : (क) विगत 05 वर्षों में प्राप्त आवंटन तथा निर्माण कार्यों हेतु भुगतान की गई राशि की जानकारी संलग्न परिशिष्ट-अ अनुसार। (ख) उल्लेखित भुगतान की राशि ई-पेमेंट के माध्यम से किये गये। (ग) बालाघाट जिले में पदस्थ/कार्यरत अधिकारियों/कर्मचारियों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट-ब अनुसार।
निर्माणाधीन सातनारी जलाशय के भूमि अधिग्रहण
[राजस्व]
161. ( क्र. 2853 ) श्री मधु भगत : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जल संसाधन विभाग द्वारा परसवाड़ा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत निर्माणाधीन सातनारी जलाशय के भूमि अधिग्रहण, वन विभाग को राजस्व विभाग द्वारा किया जाना था, उक्त संबंध में प्रश्न दिनांक तक क्या कार्यवाही की गई? की गई कार्यवाही के समस्त दस्तावेज उपलब्ध करावें। (ख) राजस्व विभाग द्वारा सातनारी जलाशय के भूमि अधिग्रहण में कितनी हेक्टेयर भूमि की वन विभाग को दिया जाना प्रस्तावित है? समस्त दस्तावेज उपलब्ध करावें। सातनारी जलाशय निर्माण के लिए भूमि अधिग्रहण की कार्यवाही कब तक पूर्ण की जाएगी और नहीं तो क्यों?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) परसवाडा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत निर्माणाधीन सातनारी जलाशय के निर्माण कार्य में कुल रकबा 53.4 हेक्टेयर वन भूमि प्रभावित हुई है, जिसके विरूद्ध राजस्व विभाग द्वारा वन विभाग के मापदण्ड के अनुसार बडो/छोटे झाड़ के जंगल की 33.36 के मान से दुगुनी भूमि 66.72 हेक्टेयर भूमि ग्राम पाण्डेवाडा में न्यायालय कलेक्टर बालाघाट के रा.प्र.क्र./0026/अ-59 वर्ष 2022-2023 मौजा पाण्डेवाडा में संशोधित पारित आदेश दिनांक 4 मई 2023 द्वारा हस्तांतरित की जा चुकी है तथा न्यायालय कलेक्टर बालाघाट के रा.प्र.क्र./0041/अ-59 वर्ष 2022-2023 में पारित संशोधित आदेश दिनांक 29 अक्टूबर, 2024 द्वारा पूर्व में जारी आदेश में आंशिक संशोधन करते हुए ग्राम कनारी में चारागाह मद की कुल 20 हेक्टेयर भूमि सातनारी जलाशय योजना के निर्माण हेतु वन विभाग को वैकल्पिक वृक्षारोपण हेतु भूमि हस्तांतरित की गई तत्संबंधी दस्तावेज/आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "अ'' एवं 'ब' अनुसार। (ख) सातनारी जलाशय के भूमि अधिग्रहण में रकबा 53.4 हेक्टेयर के विरूद्ध 86.72 हेक्टेयर भूमि वन विभाग को हस्तांतरित की जा चुकी है, तत्संबंधी दस्तावेज/आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट "अ'' एवं 'ब' अनुसार है। सातनारी जलाशय के भूमि अधिग्रहण के संबंध में सम्पूर्ण कार्यवाही की जा चुकी है। कोई कार्यवाही शेष नहीं है
सी.एम. राइज स्कूल
[स्कूल शिक्षा]
162. ( क्र. 2856 ) श्री प्रेमशंकर कुंजीलाल वर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिवनी-मालवा विधानसभा क्षेत्र में कहां-कहां सी.एम. राइज स्कूल स्वीकृत किए गए हैं? (ख) इनके निर्माण की क्या स्थिति है? कब तक पूर्ण होंगे? (ग) वर्ष 2025-26 में सिवनी-मालवा विधानसभा में कहां सी.एम. राइज स्कूल प्रस्तावित है? (घ) क्या तहसील शिवपुर एवं तहसील डोलरिया में वर्ष 2025-26 में सी.एम. राइज स्कूल स्वीकृत किए जाएंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) सिवनी-मालवा विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत सिवनी- मालवा में सी.एम. राईज स्कूल स्वीकृत किया गया है। (ख) स्कूल भवन का निर्माण कार्य फिनिशिंग स्तर पर है, दिनांक 30.04.2025 तक पूर्ण होना संभावित है। (ग) एवं (घ) सी.एम. राइज विद्यालयों की स्वीकृति बजट की उपलब्धता एवं सक्षम स्वीकृति पर निर्भर है। अतएव निश्चित स्थान एवं संख्या उपलब्ध कराया जाना संभव नहीं है।
शासकीय हॉस्पिटल में रख-रखाव हेतु बजट
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
163. ( क्र. 2858 ) डॉ. विक्रांत भूरिया : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि प्रदेश के सभी जिलों में संचालित शासकीय हॉस्पिटल के रख-रखाव, पर वर्ष 2019 से 2025 तक कितना खर्च, किस मद से प्रति वर्ष कितना किया गया? संपूर्ण जानकारी विस्तृत रूप से दी जाए।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : जानकारी सलंग्न परिशिष्ट अनुसार।
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के बजट और खर्च की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
164. ( क्र. 2859 ) डॉ. विक्रांत भूरिया : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2019 से 2025 तक "राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन" के तहत प्रदेश के प्रति जिले, प्रति ब्लॉक कितना बजट रहा है, इस बजट का उपयोग और खर्च की जानकारी प्रति मद, प्रति आयटम अनुसार दी जाए। (ख) समस्त जिलों में कितने लिपिक वर्ग के कर्मचारी एक ही जिले में 5 वर्ष से अधिक समय से अपने पद पर कार्यरत है। उनके कार्यकाल की जानकारी दी जाए।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार।
गणवेश का वितरण
[स्कूल शिक्षा]
165. ( क्र. 2861 ) श्री कालु सिंह ठाकुर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश शासन की स्कूली छात्र/छात्राओं को गणवेश का वितरण करने की निर्धारित नीति, प्रक्रिया एवं व्यवस्था क्या है? इसके लिये बजट में कितनी राशि का प्रावधान किया गया? कितनी राशि आवंटित की है एवं कितनी राशि व्यय हुई है? वर्ष 2020-21 से 2024-25 तक की जानकारी दें। (ख) धरमपुरी विधानसभा को गणवेश का वितरण करने कितनी-कितनी राशि आवंटित की गई एवं कितनी-कितनी राशि व्यय हुई? वर्षवार कितने-कितने स्कूलों के कितने-कितने छात्र/छात्राओं के लिये गणवेश का वितरण किया गया एवं इस पर कितनी-कितनी राशि व्यय हुई? किस-किस शैक्षणिक वर्ष में निर्धारित नीति के तहत कितने-कितने स्कूलों के कितने-कितने छात्र-छात्राओं को कब से गणवेश का वितरण नहीं किया गया है एवं क्यों? शहरीय एवं ग्रामीण शालाओं की जनपद पंचायतवार जानकारी दें। स्कूलों की सूची दें। (ग) प्रश्नांश (ख) में किस स्तर पर गणवेश का वितरण करने की क्या व्यवस्था की गई? इसके लिये वर्षवार कितने-कितने स्व-सहायता समूहों को कब-कब, कितने-कितने गणवेश हेतु आदेश दिया गया? कितने-कितने स्व-सहायता समूहों ने कब-कब कितने गणवेश का प्रदाय किया हैं? कितने-कितने गणवेश का प्रदाय नहीं किया है एवं क्यों? इन्हें कब-कब, कितनी-कितनी राशि का भुगतान किया गया? कितने स्व-सहायता समूहों को कब से कितनी-कितनी राशि का भुगतान नहीं किया गया एवं क्यों? क्या शासन निर्धारित समयावधि में गणवेश का वितरण न करने वाले दोषी अधिकारियों पर कार्यवाही करेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' पर है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' एवं ''स'' पर है। समस्त छात्र/छात्राओं को गणवेश वितरण किया गया है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' एवं ''स'' पर है। सत्र 2020-21 में राज्य शिक्षा केन्द्र के माध्यम से तथा सत्र 2022-23 में राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के माध्यम से गणवेश प्रदाय हेतु स्व सहायता समूह को 75 प्रतिशत की राशि अग्रिम प्रदाय की गई थी। शेष 25 प्रतिशत की राशि समूह द्वारा गणवेश प्रदाय एवं शाला प्रबंधन समिति द्वारा सत्यापन उपरांत SHG जीविका पोर्टल के माध्यम से ऑनलाइन भुगतान की जाती है। उत्तरांश (ख) अनुसार शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पर्यटन नगरी मांडू में विकास कार्य
[पर्यटन]
166. ( क्र. 2862 ) श्री कालु सिंह ठाकुर : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) केंद्र सरकार ने पर्यटन नगरी मांडू को स्वदेश दर्शन योजना के तहत हेरिटेज सर्किट से जोड़ा है। जानकारी के अनुसार पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए 25 करोड़ की राशि खर्च की जाना है? इस दिशा में क्या कार्यवाही आगे बढ़ी है और क्या योजना है? (ख) पर्यटन नगरी मांडू से लगे पांच आदिवासी गांव मालीपुरा, सुलीबयादी, भील बरखेड़ा, सोनगढ़, में पर्यटन बोर्ड मध्य प्रदेश शासन द्वारा ट्राइबल टूरिज्म और होमस्टे स्थापित करने की योजना थी। पिछले 6-7 वर्षों में मात्र मालीपुर गांव में तीन-चार होमस्टे बन पाए। अन्य गांव में एक भी होम स्टे नहीं बना है जबकि योजना के लिए पर्यटन बोर्ड के एन.जी.ओ. को राशि का भुगतान हुआ है। आदिवासियों को पर्यटन के माध्यम से रोजगार दिलाने की इस योजना पर गंभीरता से काम होना जरूरी है आगामी योजना से अवगत करवाएं। (ग) पर्यटन बोर्ड मध्य प्रदेश शासन के अंतर्गत मांडू और आसपास के क्षेत्र में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए कौशल विकास विभाग पर्यटन बोर्ड द्वारा एन.जी.ओ. काम कर रहे हैं। इन्हें बड़ी राशि का भुगतान हो चुका है। पर पर्यटन को बढ़ावा देने की दिशा में सफलता नजर नहीं आती। समस्त एन.जी.ओ. के नाम और अब तक भुगतान की गई राशि के साथ किस योजना के अंतर्गत उन्हें काम दिया गया, इसकी जानकारी उपलब्ध करवाए।
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) भारत सरकार, पर्यटन मंत्रालय की स्वदेश दर्शन योजनान्तर्गत "हेरिटेज" सर्किट में मांडू को जोड़ा गया था। उक्त सर्किट के अंतर्गत निर्मित पर्यटन अधोसंरचनाओं का कार्य पूर्ण हो चुका हैं। पर्यटन मंत्रालय, भारत सरकार "Challenge Based की Destination Development Scheme, जिसके अंतर्गत माण्डू का रूपये 25 करोड़ की स्वीकृति का प्रस्ताव भारत सरकार के विचाराधीन है। (ख) ग्रामीण पर्यटन परियोजना अंतर्गत पर्यटन नगरी माण्डू के निकट चार ग्रामों में निम्नानुसार कार्य किया जा रहा है-
क्र. |
ग्राम का नाम |
निर्मित होमस्ट की संख्या |
निर्माणाधीन होमस्टे की संख्या |
1 |
मालीपुरा |
4 |
1 |
2 |
सूलीबरडी |
0 |
1 |
3 |
भीलबरखेड़ा |
2 |
3 |
4 |
ग्यानपुरा |
2 |
3 |
(ग) 1. परियोजना सहयोगी संस्था कार्ड को 03 गांव-भीलबरखेड़ा, सूलीबर्डी एवं ग्यानपुरा आवंटित हैं। अतः उसे प्राथमिक प्रतिवेदन के आधार पर राशि रू. 2.00 लाख प्रति गांव कुल राशि रू. 6.00 लाख का भुगतान किया गया है। 2. परियोजना सहयोगी संस्था वसुधा संस्थान को 01 गांव-मालीपुरा आवंटित हैं। अतः उसे राशि रू. 2.00 लाख का भुगतान किया गया है। सभी संस्थाएं योजना अनुसार कार्य कर रही हैं।
नक्शों, सर्वे नंबरों में त्रुटियां
[राजस्व]
167. ( क्र. 2865 ) श्री दिनेश जैन बोस : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत तहसील नागदा अंतर्गत ग्राम रूपेटा में नक्शों एवं सर्वे नंबरों में त्रुटियां पाई जाना पाया गया है? यदि हाँ, तो इसके लिए कौन जिम्मेदार है? त्रुटियां पाए जाने के क्या कारण हैं? सर्वे नंबरवार, कृषकवार विवरण देवें। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में त्रुटियों को सही करने हेतु कितनी शिकायतें प्राप्त हुई हैं? कितनी शिकायतों का निराकरण कर दिया गया है एवं कितनी शेष है, शेष रहने के क्या कारण है? बताएं कि उक्त त्रुटियों को सही करने हेतु विभाग द्वारा कोई कार्यवाही की गई है? यदि हाँ, तो अवगत कराएं। (ग) विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत जनवरी 2023 से प्रश्न दिनांक तक तह. महिदपुर, झारड़ा एवं नागदा में तहसीलदार द्वारा नामांतरण के लिए किए गए आदेशों में से पटवारियों द्वारा कितने आदेशों का अमल किया गया है एवं कितनी का प्रश्न दिनांक तक अमल नहीं किया गया? तहसीलवार, ग्रामवार, कृषक के नामवार विवरण देवें। पटवारियों द्वारा नियत समयावधि में अमल नहीं किए जाने के क्या कारण है? स्पष्टीकरण देवें। पटवारियों द्वारा आदेशों का पालन नहीं किए जाने पर कोई कार्यवाही की जाएगी?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। तहसील नागदा अंतर्गत ग्राम रूपेटा में बंदोबस्त के दौरान कुछ नक्शे एवं सर्वे नम्बरों में त्रुटि होने संबंधी शिकायतें प्राप्त हुई हैं। प्राप्त शिकायत की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) उत्तरांश (क) में जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार प्राप्त 6 शिकायतों के संबंध में नियमानुसार मध्य प्रदेश भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 115 के तहत प्रकरण दर्ज कर कार्यवाही प्रचलित है। (ग) विधानसभा क्षेत्र महिदपुर के अंतर्गत नागदा, महिदपुर एवं झारडा में जनवरी 2023 प्रश्न दिनांक तक नामांतरण आदेशों का अमल निरंतर किया गया है, तहसील महिदपुर के ग्राम बरखेडा बुजुर्ग में 01 प्रकरण रोहित आंजना पिता जीवनसिंह निवासी आगर रोड सुरासा तहसील घटिया का नामान्तरण डायवर्सन खसरा प्रोसेसिंग में होने से शेष है।
समस्त नस्तियों की प्रमाणित प्रतियों का प्रदाय
[स्कूल शिक्षा]
168. ( क्र. 2868 ) श्री महेश परमार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राज्य शिक्षा केंद्र भोपाल ने ई.एंड.आर. शाखा से निम्नलिखित पत्र जारी किए हैं? पत्र क्रमांक/दिनांक क्रमशः 11318/31/12/13, 5557/15/07/15, 4754/03/07/17, 7795,7796/27/10/17, 858,857/30/01/20, 100/13/08/21, 5841, 5842/25/10/21, यदि हाँ, तो इन सभी की नोटशीट एवं संबंधित प्रकरणों की समस्त मूल नस्तियों की प्रमाणित प्रतियां उपलब्ध करावें। (ख) राज्य शिक्षा केंद्र भोपाल किन-किन अधिनियमों, नियमों से प्रशासित होता हैं? उन सभी की प्रतियां देवें। (ग) इस प्रश्न के प्रश्नांश (क) के अनुक्रम में मध्यप्रदेश शासन के कार्य नियम 12 के परिपालन में विभाग के प्रमुख सचिव ने किन-किन अधिनियम एवं नियम की किन-किन कंडिकाओं, धाराओं का अनुसरण किया? जिसके आधार पर उक्त सभी परिपत्र जारी किए गए? उन सभी की प्रमाणित प्रतियां देवें। (घ) उपरोक्त सभी निर्देशों को कौन-कौन सी राज्य शिक्षा केंद्र भोपाल की राज्य कार्यकारिणी की बैठक में रखा गया हैं? उन सभी बैठकों की कार्य विवरण एवं एजेंडे की प्रमाणित प्रतियां देवें। (ड.) मध्यप्रदेश शासन सामान्य प्रशासन विभाग के कार्य नियमों का पालन सचिवों का दायित्व का परिपत्र क्रमांक एफ, ए 1-1- 95/एक (1) भोपाल दिनांक 23 जनवरी 1995 की प्रति देवें और देखकर बताएं प्रश्न के प्रश्नांश (क) से (घ) तक के अनुक्रम में क्या प्रशासित नियमों, अधिनियमों के मापदंड कंडिकाओं का पालन किया जाता हैं यदि हाँ, तो, उपरोक्त नोटशीट में उनके उल्लेख की जांच कर प्रति नियम पालन प्रतिवेदन प्रस्तुत करें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'1' पर है। ये सभी पत्र एवं नोटशीट विधान सभा अतारांकित प्रश्न क्र 768 दिनांक 03.07.2024 एवं विधान सभा अतारांकित प्रश्न क्र. 200 दिनांक 18.12.2024 द्वारा पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) राज्य शिक्षा केन्द्र स्कूल शिक्षा विभाग के अंतर्गत संचालित होता है। राज्य शिक्षा केन्द्र के अधीन समग्र शिक्षा अभियान, नव साक्षर अभियान, राज्य शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (एस.सी.ई.आर.टी.) एवं जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डाईट) संचालित है। म.प्र. राज्यपत्र दिनांक 22.06.2022 के अनुसार जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (डाईट) कैडर को समाप्त कर लोक शिक्षण संचालनालय में विलय हो गया है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'2' पर है। राज्य शिक्षा केन्द्र के नियम एवं अधिनियम की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट -'3' पर है। (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है। (घ) राज्य स्तरीय कार्यकारिणी समिति की बैठक दिनांक 29.08.2013, दिनांक 07.12.2015 एवं 17.11.2016 की कार्यवाही विवरण एवं एजेण्डा टीप की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट -'4' पर है। (ड.) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
बाह्य स्त्रोत कर्मचारियों की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
169. ( क्र. 2869 ) श्री नागेन्द्र सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रीवा जिले के जिला चिकित्सालय एवं मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कार्यालय अंतर्गत वित्तीय वर्ष 2021-22 से जनवरी 2025 तक बाह्य स्त्रोत एजेंसी के माध्यम से कितने कुशल, अर्धकुशल एवं अकुशल श्रमिकों द्वारा कार्य किया गया? वर्षवार, श्रेणीवार, विवरण उपलब्ध करायें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या श्रमिकों का पुलिस वेरीफिकेशन किया गया? यदि हाँ, तो किये गये वेरीफिकेशन की प्रतियाँ उपलब्ध करायें, यदि नहीं, तो श्रमिकवार कारण सहित विवरण उपलब्ध करायें। (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार बाह्य स्त्रोत एजेंसी की नियुक्ति से संबंधित दिशा-निर्देशों एवं तदानुसार दस्तावेजों की जानकारी का वर्षवार विवरण उपलब्ध करायें। (घ) क्या बाह्य स्त्रोत एजेंसियों द्वारा प्रदेश में लागू श्रम कानूनों एवं नियमों का पालन किया गया है? यदि हाँ, तो लागू श्रम कानूनों एवं नियमों अनुसार श्रमिकों को प्रदत्त लाभ यथा न्यूनतम वेतन, समान पारिश्रमिक, बोनस, ग्रेच्युटी, पी.एफ., ई.एस.आय. इत्यादि से संबंधित जानकारी का विवरण उपलब्ध करायें। (ड.) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या प्रश्नांकित अवधि में बाह्य स्त्रोत एजेंसियों के विरुद्ध कोई शिकायत या आपत्ति दर्ज कराई गई है? यदि हाँ, तो तत्सम्बंध में बाह्य स्त्रोत एजेंसियों के विरुद्ध की गई कार्यवाही से संबंधित विवरण दस्तावेजों सहित उपलब्ध करायें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार। (ख) जी हाँ। नियोजित श्रमिकों का पुलिस वेरिफिकेशन का कार्य संबंधित ऐजेंसी द्वारा किया जाता है, समस्त नियोजित श्रमिकों का पुलिस वेरिफिकेशन का कार्य किये जाने हेतु संबंधित एजेन्सी को निर्देशित किया गया है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार। (घ) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'स' अनुसार। (ड.) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विभागीय कार्यों की जानकारी
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
170. ( क्र. 2870 ) श्री नागेन्द्र सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रीवा जिले के उप संचालक, खाद्य एवं औषधि प्रशासन कार्यालय में स्वीकृत पदों के विरुद्ध कितने अधिकारी/कर्मचारी पदस्थ हैं? नाम, पदनाम, पदस्थापना दिनांक सहित कार्य विभाजन एवं विभागीय दायित्वों की जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) रीवा जिले में कितने लायसेंसधारी होटल/रेस्टोरेंट/दूध डेयरी संचालित हैं? नाम, पता सहित विवरण उपलब्ध करायें, उपरोक्त प्रतिष्ठानों के खाद्य निरीक्षकों द्वारा किये गये निरीक्षण, निरीक्षण के दौरान की गई कार्यवाही (जाँच, नमूना एकत्रीकरण एवं अन्य), जाँच/नमूना एकत्रीकरण पश्चात की गई कार्यवाही से संबंधित दस्तावेजों का विवरण, खाद्य निरीक्षकों की मासिक दैनंदिनी भ्रमण डायरी, भ्रमण/निरीक्षण/ जाँच संबंधी शासन के दिशा-निर्देशों की प्रति वित्तीय वर्ष 2021-22 से प्रश्न दिनांक तक उपलब्ध करायें।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र '1' अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र '2-A' एवं '2-B अनुसार।
संकुल में पदस्थ शिक्षकों की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
171. ( क्र. 2875 ) डॉ. राजेश सोनकर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला देवास एवं इंदौर में ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्र में कुल कितने संकुल स्थापित है? कृपया ब्लॉकवार सूची उपलब्ध कराने का आग्रह है। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में किस-किस संकुल में छात्र-छात्रों के अनुपात में किस-किस विषय के शिक्षक पदस्थ है एवं और किस विषय के कितने कितने पद रिक्त है? विस्तृत जानकारी प्रदान करें। (ग) सेवानिवृत्त हुए शिक्षक, स्थानांतरित हुए और किसी अन्य कारण से शालाओं में हुए रिक्त पदों की जानकारी पोर्टल पर कितने समय में अपलोड कर दी जाती है अथवा रिक्त पदों की जानकारी पोर्टल पर अपलोड करने की कितनी समय-सीमा निर्धारित है? निर्धारित समय-सीमा में रिक्त पदों की जानकारी पोर्टल पर अपलोड नहीं करने के लिए जिम्मेदार कौन होता है और उन पर क्या कार्यवाही करने का नियम है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे पेनड्राइव में परिशिष्ट-1 पर है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे पेनड्राइव में परिशष्ट-2 पर है। (ग) स्थानांतरण/सेवा निवृत्ति/अथवा अन्य कारण से वेतन रोकने की जानकारी अपलोड करने पर रिक्त पदों की जानकारी पोर्टल पर स्वतः ही अपडेट होती हैं। समय-सीमा निर्धारित नहीं है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शिक्षकों को क्रमोन्नति योजना का लाभ
[स्कूल शिक्षा]
172. ( क्र. 2876 ) डॉ. राजेश सोनकर : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के विधानसभा प्रश्न क्रमांक 1834 दिनांक 10.7.2024 के संदर्भ में जिला इंदौर अंतर्गत प्राथमिक एवं माध्यमिक शिक्षकों को क्रमोन्नति योजना में सम्मिलित करने के लिए मध्य प्रदेश स्कूल शिक्षा विभाग के आदेश क्रमांक 3606/2020/20-1/1732 दिनांक 5.10.2023 द्वारा प्राथमिक शिक्षक संवर्ग को सहायक शिक्षक एवं उच्च श्रेणी शिक्षक संवर्ग की भांति क्रमोन्नति योजना में सम्मिलित करने की योजना के आदेश को क्या प्रश्न दिनांक तक अमल में लाने के लिए कोई कार्रवाई हुई है? यदि हाँ, तो जिले में कितने प्राथमिक एवं माध्यमिक शिक्षकों को क्रमोन्नति योजना में सम्मिलित कर लिया गया है और कितने शिक्षक शेष है? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में जिले की संकुलवार जानकारी उपलब्ध कराएं। (ग) योजना में विभागीय आदेश जारी हो जाने के उपरांत संकुलवार कितने शिक्षक शामिल करना शेष है और शिक्षक शेष क्यों है? इसके लिए जिम्मेदार कौन है और क्या जिम्मेदार लिपिक या संकुल प्रभारी पर कोई कार्यवाही करने का प्रावधान है? (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में इंदौर जिले के संकुल धरमपुरी (सोलसिन्दा) में किन 16 शिक्षकों के क्रमोन्नति आदेश विभाग द्वारा जारी करने के बाद भी उन्हें क्रमोन्नति का लाभ क्यों नहीं दिया जा रहा है? कृपया कारण स्पष्ट करें और दोषियों पर क्या एवं कब तक कार्यवाही की जावेगी?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। संवर्ग के सभी शिक्षक योजना में सम्मिलित है। इन्दौर जिलान्तर्गत 2139 प्राथमिक शिक्षक एवं 669 माध्यमिक शिक्षक को क्रमोन्नत का लाभ प्राथमिक एवं माध्यमिक शिक्षकों को लाभ दिया गया। शेष 499 प्राथमिक शिक्षक एवं 381 माध्यमिक शिक्षक शेष है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-एक अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-दो अनुसार है। क्रमोन्नित का लाभ एक सतत् प्रक्रिया है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) शासकीय मा.वि. सोलसिन्दा में 16 शिक्षक पदस्थ न होकर 05 शिक्षक पदस्थ है जिनमें 03 लोक सेवको को क्रमोन्नति का लाभ दिया गया है, शेष 02 लोक सेवकों को 24 वर्ष का सेवाकाल पूर्ण नहीं होने से क्रमोन्नति का लाभ नहीं दिया गया है शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पीवीसी कार्ड सर्विस चार्ज
[परिवहन]
173. ( क्र. 2880 ) श्री विपीन जैन : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) परिवहन विभाग द्वारा नए पंजीयन व ड्राइविंग लाइसेंस नए व पुराने नवीकरण, पुराने वाहन के समस्त कार्य में प्लास्टिक कार्ड/पीवीसी कार्ड बनाने का कितना शुल्क सर्विस चार्ज के रूप में लिया जा रहा है? (ख) क्या दिनांक 01.10.2024 के बाद आरसी कार्ड प्रदान नहीं किये जा रहे हैं और शुल्क वसूला जा रहा है तथा हितग्राहियों को बाजार से रुपए देकर कार्ड प्रिंट करवाना पड़ रहे हैं? (ग) वर्तमान में यह कार्य किस कंपनी के द्वारा किया जा रहा है पूर्व में कार्यरत कंपनी का अनुबंध कब समाप्त हो गया है?
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) वाहन पंजीयन कार्ड एवं ड्रायविंग लायसेंस कार्ड हेतु रू. 200 शुल्क लिया जा रहा है। (ख) मध्यप्रदेश शासन, परिवहन विभाग की अधिसूचना क्र. एफ-22-13-2018-आठ दिनांक 03, अक्टूबर 2024 द्वारा दिनांक 01.10.2024 से ड्रायविंग लायसेंस और वाहन पंजीयन प्रमाण-पत्र इलेक्ट्रॉनिक रूप में जारी किये जाने के प्रावधान किये गये हैं, जिसके पालन में उक्त दिनांक से प्रदेश में ड्रायविंग लायसेंस और वाहन पंजीयन प्रमाण-पत्र इलेक्ट्रॉनिक रूप में जारी किये जा रहे हैं। आवेदक को उनके ई-ड्रायविंग लायसेंस और ई-वाहन पंजीयन प्रमाण-पत्र के प्रिंटेबल पीडीएफ फार्मेट प्राप्त करने हेतु वाहन/सारथी पोर्टल के डेटाबेस में उनके रजिस्टर्ड मोबाइल पर लिंक प्राप्त होती है जिसके माध्यम से अथवा परिवहन सेवा सिटीजन पोर्टल पर जाकर वे अपना ई-ड्रायविंग लायसेंस अथवा ई-वाहन पंजीयन प्रमाण-पत्र प्राप्त कर सकते हैं। केन्द्रीय मोटरयान नियम, 1989 के नियम 139 के अनुसार वाहन के पंजीयन प्रमाण, फिटनेस प्रमाण-पत्र, परमिट, ड्रायविंग लायसेंस आदि दस्तावेजों को इलेक्ट्रॉनिक रूप में प्रस्तुत करने को वैधानिक रूप से मान्य किया गया है तथा उक्त नियमों के नियम 139क में वाहन चैकिंग अधिकारी द्वारा मोटरयान अधिनियम एवं नियमों के उल्लंघन के अपराधों में वाहन के इलेक्ट्रॉनिक दस्तावेजों को जप्त किये जा सकने के प्रावधान भी किये गये हैं। सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा परिपत्र जारी कर वाहनों के दस्तावेजों को इलेक्ट्रॉनिकली प्रस्तुत एवं मान्य किये जाने के विधिक प्रावधान, वेलिडेशन, ई-चालान ऐप पर चालान बनाने की प्रक्रिया, लायसेंस, पंजीयन निलंबन हेतु अनुशंसा संबंधी प्रावधान उल्लेखित किये गये हैं, जिनका प्रदेश में पालन किया जा रहा है। उक्त कारणों से हितग्राहियों को अपने ड्रायविंग लायसेंस/रजिस्ट्रेशन कार्ड, बाजार से रूपये देकर प्रिंट कराने की कोई आवश्यकता नहीं है। (ग) वर्तमान में यह कार्य किसी कंपनी द्वारा नहीं किया जा रहा है। पूर्व में कार्यरत कंपनी द्वारा विभाग से अनुबंध समाप्त होने पर उनके द्वारा दिनांक 30.09.2024 से कार्य करना बंद कर दिया गया है।
वेबस नदी पर ग्राम चौका में पुल के पास डेम निर्माण
[जल संसाधन]
174. ( क्र. 2886 ) श्री वीरेन्द्र सिंह लोधी : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के पत्र क्र. 2300045 दि.11.01.2024 में वर्णित बिन्दु क्र 8 द्वारा बण्डा में वेबस नदी पर ग्राम चौका के पास बरा रोड पर बने पुल के अपस्ट्रीम की ओर स्टॉप-डेम के निर्माण की मांग की गई थी उस पर अब कार्यवाही की गई है? (ख) क्या उक्त निर्माण हेतु साध्यता स्वीकृति जारी की गई है? (ग) अगर नहीं तो इसमें कितना समय लगेगा? इसमे विलम्ब का कारण क्या है? (घ) क्या प्रश्नांश (क) में वर्णित स्थान पर नवीन एवं पुराने पुल की अपस्ट्रीम या डाउन स्ट्रीम पर स्टॉप डेम या डेम में से कौन सी संरचना का निर्माण तकनीकी रूप से साध्य होगा? (ड.) क्या प्रश्नांश (क) में वर्णित स्थान पर पुराने-पुल का उपयोग/सहयोग/सुदृढ़ीकरण/विघटन द्वारा इसे डेम की तरह परिवर्तित करने की संभावनाओं पर विचार किया जा सकता है? भौतिक निरीक्षण कर इसकी संभावनाओ और साध्यता के पक्ष व विपक्ष के तकनीकी बिन्दुओं पर विस्तृत प्रतिवदेन दिया जाय। (च) नवीन-पुल के अपस्ट्रीम अथवा डाउन स्ट्रीम पर कितनी ऊंचाई के डेम का निर्माण संभव है? उसकी भराव क्षमता एवं लाभ के संबंध में प्रतिवदेन दिया जाय।
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) एवं (घ) जी हां, बेवस नदी पर ग्राम चौका के पास बरा रोड़ पर बने पुल के अपस्ट्रीम की ओर स्टॉपडेम के निर्माण की मांग की जाना प्रतिवेदित है। स्टॉप डेम की साध्यता परीक्षणोपरांत तकनीकी एवं वित्तीय मापदण्डों के अनुरूप पाये जाने पर ही स्वीकृत किया जाना संभव होगा। (ख) जी नहीं। (ग) वर्तमान में समयावधि बताया जाना संभव नहीं है। शेष प्रश्नांश का उपस्थित नहीं होता। (ड.) जी नहीं, विस्तृत प्रतिवेदन पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (च) योजना की साध्यता अप्राप्त है। अतः वर्तमान में प्रश्नांश का उत्तर दिया जाना संभव नहीं है।
मध्यप्रदेश में स्कूल क्रिकेट किट की खरीदी
[स्कूल शिक्षा]
175. ( क्र. 2887 ) श्री कैलाश कुशवाहा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश में पूर्व में माध्यमिक एवं हाई स्कूल के लिये बच्चों को खेल किट खरीदने का अधिकार जिला मुख्यालय पर था, जिसका बजट बच्चों की फीस में से राज्यस्तर से जिला स्तर पर भेजा जाता था स्कूल शिक्षा विभाग के उप सचिव ने दिनांक 25/09/2024 को आदेश जारी कर स्कूल किट (खेल) को राज्य स्तर पर खरीदने का निर्णय लिया है पहले 1800 रूपयें में किट मिल जाती थी, लेकिन जिला स्तर पर अब 3000 रूपये में मिलेगी जिसकी खरीद राज्य स्तर पर होगी, यदि राज्य स्तर पर खरीददारी से लागत कम होनी चाहिए थी, तो किट की गुणवत्ता घटाकर कीमत बढ़ाने की जरूरत क्यों पड़ी? क्या, अब संभाग जिला के लोग बच्चों की किट लेने भोपाल जा रहे है? क्या इस खरीदी प्रक्रिया में कोई बाहरी निजी कंपनियों का फायदा हो रहा है? (ख) इस नीति में बदलाव का निर्णय लेने से पहले क्या जिला स्तर के अधिकारियों, स्कूल प्रबंधन और पालकगणों से कोई सुझाव लिये गये? (ग) क्या सरकार ने यह सुनिश्चित किया कि राज्य स्तर पर खरीदने से बच्चों तक किट सही समय पर पहुंचेगी? क्या राज्य स्तर पर खेल किट खरीदने का निर्णय लेने से पहले किसी स्वतंत्र एजेंसी से लागत और गुणवत्ता पर अध्ययन करवाया गया था?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) माध्यमिक स्कूलों हेतु जिला मुख्यालय से खेल किट क्रय किए जाने हेतु कोई निर्देश जारी नहीं किए गए है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। राज्य कार्यकारिणी के निर्णय अनुसार सत्र 2024-25 में उपलब्ध राशि से खेल एवं युवक कल्याण विभाग के माध्यम से खेल किट क्रय किए जाने की प्रक्रिया की जा रही है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों के संबंध में संभाग स्तरीय शालेय क्रीड़ा प्रतियोगिताओं में सहभागिता करने वाले प्रतिभागियों हेतु स्पोर्टस किट जिला स्तर पर क्रीड़ा अंशदान निधि से क्रय किये जाने का प्रावधान था। विभागीय आदेश दिनांक-25/09/2024 द्वारा राष्ट्रीय शालेय क्रीड़ा प्रतियोगिता में सहभागिता करने वाले प्रतिभागियों हेतु स्पोर्टस किट की दर 1800 रूपयें प्रति प्रतिभागी के स्थान पर 3000 रूपयें प्रति प्रतिभागी की गई। समस्त प्रतिभागियों को एकरूपता से उच्च गुणवत्ता की किट उपलब्ध कराने हेतु दरों में वृद्धि कर, राज्य स्तर से क्रय किये जाने की कार्यवाही की गई। राष्ट्रीय शालेय क्रीड़ा प्रतियोगिताओं हेतु नियुक्त मुख्य दल प्रबंधकों को समस्त प्रतियोगिता में सहभागिता हेतु अभिलेखों के साथ स्पोर्टस किट संचालनालय द्वारा प्रदाय की जाती है। जी नहीं भण्डार क्रय नियमों के अनुसार क्रय की कार्यवाही की गई है। (ख) माध्यमिक स्कूलों हेतु राज्य कार्यकारिणी समिति के निर्णय अनुसार कार्यवाही की गई है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों के संबंध में राज्य स्तर पर गठित तकनीकि समिति की अनुशंसा अनुसार व्यवस्था की गई है। तकनीकि समिति में जिला क्रीड़ा अधिकारी, व्यायाम शिक्षक, पूर्व उत्कृष्ट खिलाड़ी एवं खेल एवं युवा कल्याण विभाग के अधिकारी सम्मिलित है। (ग) जी हाँ। माध्यमिक स्कूलों हेतु क्रय की प्रक्रिया खेल एवं युवक कल्याण विभाग के द्वारा की जा रही है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों के संबंध में स्पोर्टस किट की क्रय प्रक्रिया में खेल एवं युवा कल्याण विभाग द्वारा निर्धारित स्पेसिफिकेशन, गुणवत्ता को संज्ञान में लिया गया है।
बैराज का निर्माण
[जल संसाधन]
176. ( क्र. 2888 ) श्रीमती सेना महेश पटेल : क्या जल संसाधन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अलीराजपुर जिले की विधान सभा क्षेत्र क्रमांक 192 जोबट क्षेत्र अंतर्गत जल संसाधन विभाग द्वारा वर्ष 2023 से प्रश्न दिनांक तक कितने बैराज निर्माण हेतु ग्राम, स्थल चयन किये गये है? ग्रामवार सूची उपलब्ध करावें। यदि नहीं, तो कब तक सर्वे कर ग्राम, स्थल चयन किया जाएगा? (ख) यदि बैराज हेतु ग्राम, स्थल चयन किये गये है तो उस पर क्या कार्यवाही की गई है? (ग) वर्तमान में बैराज निर्माण हेतु जल संसाधन विभाग के पास स्वीकृति हेतु लंबित है? यदि हाँ, तो कौन-कौन से ग्रामवार सूची देवें तथा कब तक स्वीकृति दी जावेगी अवधि बतावें।
जल संसाधन मंत्री ( श्री तुलसीराम सिलावट ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) बैराज निर्माण हेतु चिन्हित 08 कार्यों में से 03 कार्यों की साध्यता स्वीकृति प्रदान कर दी गई है, प्रशासकीय स्वीकृति हेतु डी.पी.आर. विभागीय स्तर पर प्रक्रियाधीन है एवं शेष 05 कार्यों की साध्यता प्रस्ताव परीक्षणाधीन है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) उत्तरांश (क) एवं (ख) अनुसार। अत: निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
चिकित्सा महाविद्यालय में खरीदी प्रक्रिया
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
177. ( क्र. 2889 ) श्री मथुरालाल डामर : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रतलाम के चिकित्सा महाविद्यालय में सत्र 2020-21 से प्रश्न दिनांक तक कुल कितनी दंवाइयां, उपकरण, प्रिंटिंग, स्टेशनरी, फर्नीचर और हॉस्पिटल में लगने वाली समस्त प्रकार की सामग्री किस-किस फर्म/एजेंसी से क्रय की गई? कितनी-कितनी राशि की क्रय की गई l सामग्री क्रय हेतु क्या प्रक्रिया अपनाई टेंडर, जेम पोर्टल, ल.उ.नि. अथवा ओपन मार्केट सभी का नाम, पते सहित विवरण देवेंl (ख) उपरोक्त खरीदी गई पर कितना टी.डी.एस. काटा गया देयकवार विवरण देवें। (ग) प्रश्नांश (क) और (ख) के सन्दर्भ में उपरोक्त सामग्री हेतु क्रय समिति का अनुमोदन लिया गया यदि हाँ, तो समिति के सदस्य के नाम, पते सहित पूरी जानकारी देवें। (घ) क्या आवश्यकता से अधिक सामग्री का क्रय की गई यदि हाँ, तो इसके लिए कौन जवाबदार है और उन पर क्या कार्यवाही की जाएगी?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) चिकित्सा महाविद्यालय रतलाम द्वारा वर्ष 2020-2021 से प्रश्न दिनांक तक क्रय की गई सामग्री, फर्म/ एजेंसीवार, राशिवार एवं क्रय प्रक्रिया की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-1 अनुसार है। (ख) उपरोक्त खरीदी गई सामग्री पर काटे गए टीडीएस की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-2 अनुसार है। (ग) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-3 अनुसार है। (घ) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
क्षेत्र में पर्यटन को बढ़ावा देने की योजना
[पर्यटन]
178. ( क्र. 2890 ) श्री हरदीप सिंह डंग : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश शासन द्वारा केन्द्र सरकार उड़ान (राष्ट्रीय नागर विमानन प्रोत्साहन नीति) योजना के समन्वय से मध्यप्रदेश सिविल एविएशन पॉलिसी-2025 योजना की जानकारी देवें। (ख) उपरोक्त योजना के तहत पर्यटन, धार्मिक और औद्योगिक क्षेत्र को बढ़ावा देने के तहत सुवासरा विधानसभा में यूनेस्को के विश्व हेरिटेज स्थलों की विश्व धरोहर की सूची में अस्थाई रूप से सम्मिलित धर्मराजेश्वर, एशिया की द्वितीय सबसे बड़ी लाईब्रेरी नटनागर शोध संस्थान पर्यटन स्थल चंबल, आनंद धाम जैन तीर्थ, परासली धाम, शेल गुफाऐं, बसई, सेमली कांकड़ में औद्योगिक क्षेत्र को बढ़ावा देने हेतु इस योजना का लाभ देने हेतु क्या योजना तैयार की जा रही है? (ग) यदि हाँ, तो क्षेत्र में इसका लाभ कब तक मिलने की संभावना है?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ख) वर्तमान में कोई योजना प्रस्तावित नहीं है। (ग) समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनों का नियमानुसार संचालन न होना
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
179. ( क्र. 2893 ) श्रीमती ललिता यादव : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छतरपुर शहर सहित छतरपुर जिले में कितनी पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनें संचालित हो रही है? पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनों के फर्म का नाम, स्थान, संचालनकर्ता का नाम एवं विभाग द्वारा जारी रजिस्ट्रेशन, पात्रता प्रमाण-पत्र की प्रति सहित बतायें। (ख) छतरपुर शहर व छतरपुर जिले में 1 अप्रैल, 2022 से प्रश्न दिनांक तक किस-किस अधिकारी द्वारा संचालित पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनों की जांच की गई जांच रिपोर्ट, अधिकारी का नाम, पद एवं की गई कार्यवाही की प्रति सहित बताये? (ग) नियम विरूद्ध संचालित पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनों के संचालन पर विभाग द्वारा क्या-क्या कार्यवाही की जा सकती है और दिनांक 1 अप्रैल, 2022 से प्रश्न दिनांक तक किस पर क्या-क्या कार्यवाही की गई पृथक-पृथक बतायें? (घ) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में पैथोलॉजी एवं एक्सरा मशीनों के संचालन में कितने लोग कार्यरत है पृथक-पृथक उनके नाम एवं पात्रता प्रमाण-पत्र की प्रति सहित बतायें?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) छतरपुर शहर सहित छतरपुर जिले में 41 पैथोलॉजी, 2 एक्सरे मशीन के स्वतंत्र केन्द्र तथा 11 केन्दों पर संयुक्त पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीन केन्द्र संचालित हो रही है। पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनों के स्थापनाकर्ता फर्म का नाम, स्थान एवं संचालनकर्ता की नामवार की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। विभाग द्वारा जारी रजिस्ट्रेशन प्रमाण-पत्र तथा पात्रता-पत्र की छायाप्रतियों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। (ख) छतरपुर शहर व छतरपुर जिले में 1 अप्रैल, 2022 से प्रश्न दिनांक तक संचालित पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनों की जांच संबंधी अधिकारी के नाम, पद, जांच रिपोर्ट एवं की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। (ग) नियम विरूद्ध संचालित पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनों के संचालन पर मध्यप्रदेश उपचर्यागृह तथा रूजोपचार संबंधी स्थापनाएं (रजिस्ट्रीकरण तथा अनुज्ञापन) अधिनियम, 1973 की धारा 5,6 एवं 8 अनुरूप कार्यवाही की जा सकती है जिसकी प्रति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' अनुसार दिनांक 01 अप्रैल, 2022 से प्रश्न दिनांक तक नियम विरूद्ध संचालित पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनों के संचालन पर की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ई'' अनुसार। (घ) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में पैथोलॉजी एवं एक्सरे मशीनों के संचालन में कार्यरत लोगों की नामवार की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ज'' अनुसार। पात्रता प्रमाण-पत्रों की प्रतियो की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार।
समयमान वेतनमान के प्रकरण
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
180. ( क्र. 2898 ) श्री माधव सिंह (मधु गेहलोत) : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग अंतर्गत संभागीय क्षेत्रीय संचालक स्वास्थ्य विभाग कार्यालय ग्वालियर में ऐसे कितने अधिकारी/ कर्मचारी कार्यरत है जिन्हें द्वितीय समयमान-वेतनमान नहीं दिया गया है? क्या कोई शिकायत/ कार्यवाही प्रचलन में है? यदि हाँ, तो उसका निराकरण कब तक किया जावेगा? यदि नहीं, तो क्यों? (ख) ऐसे कितने प्रकरण है जो समयमान/वेतनमान का सत्यापन संयुक्त संचालक कोष एवं लेखा ग्वालियर द्वारा मान्य/अमान्य किया गया है? क्षेत्रीय संचालक स्वास्थ्य द्वारा समयमान/वेतनमान को लंबित कर मार्गदर्शन हेतु संचालक स्वास्थ्य भोपाल को प्रकरण भेजा गया? यदि हाँ, तो क्यों? (ग) ऐसे कितने प्रकरण है जो संभाग स्तर पर निपट सकते थे, किन्तु उन प्रकरणों को राज्य स्तर पर मार्गदर्शन/निपटारे हेतु भेजा गया? कब तक उनका निराकरण किया जावेगा समय-सीमा बतायें। (घ) क्या प्रश्नांश (क) के संबंध में कितनी शिकायतें सी.एम. हेल्पलाईन में की गई है, कितनी शिकायतें सी.एम. हेल्पलाईन में पेंडिग है? शिकायतों का निराकरण कब तक किया जावेगा? (ड.) जिन कर्मचारियों को समय में समयमान-वेतनमान नहीं दिया गया है तो विलंब करने वाले अधिकारियों/कर्मचारियों के विरूद्ध क्या कार्यवाही की जावेगी? कब तक की जावेगी समय-सीमा बताये।
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) क्षेत्रीय संचालक, स्वास्थ्य सेवायें कार्यालय ग्वालियर में 02 कर्मचारियों को द्वितीय समयमान वेतनमान नहीं दिया गया है। जी हाँ। निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) क्षेत्रीय संचालक कार्यालय स्तर पर गठित समिति द्वारा समयमान वेतनमान स्वीकृति हेतु 05 कर्मचारियों के प्रकरणों पर विचार किया गया था जिसमें 03 कर्मचारियों को समयमान वेतनमान स्वीकृति हेतु पात्र पाया गया। पात्र पाए गए तीनों कर्मचारियों का समयमान वेतनमान का सत्यापन संयुक्त संचालक कोष एवं लेखा ग्वालियर द्वारा किया गया। उत्तरांश 'क' में वर्णित 02 कर्मचारियों की कार्यवाही प्रचलित होने के कारण समयमान वेतनमान लंबित है, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश 'क' एवं 'ख' के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश 'क' में वर्णित दो कर्मचारियों द्वारा की गई शिकायतों एवं प्रकरण की स्थिति जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। श्री श्याम स्वरूप शर्मा द्वारा माननीय उच्च न्यायालय खण्डपीठ ग्वालियर के समक्ष याचिका क्रमांक 6302/2025 प्रचलित होने एवं श्री उज्जवल श्रीवास्तव, सहायक ग्रेड-3, के अपील अभ्यावेदन पर कार्यवाही प्रचलित है। निश्चित समयावधि बताई जाना संभव नहीं है। (ड.) उत्तरांश 'क' एवं 'घ' के अनुक्रम में शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पर्यटन स्थलों का विकास
[पर्यटन]
181. ( क्र. 2899 ) श्री दिनेश गुर्जर : क्या राज्य मंत्री, पर्यटन महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मुरैना विधानसभा क्षेत्र के पर्यटक स्थल मितावली-पढ़ावली, बटेश्वर और शनिदेव मंदिर का प्रचार-प्रसार क्यों नहीं किया जाता है? क्या इन स्थलों के संबंध में बैनर/होर्डिंग आदि लगाए गए हैं यदि नहीं, तो कब तक लगाए जाएंगे? (ख) क्या पर्यटक विभाग ने नूराबाद विकास के लिए कोई योजना बनाई थी? यदि हाँ, तो योजना का विस्तृत विवरण देवें एवं बताएं की योजना अभी तक चालू क्यों नहीं हो पाई है? (ग) मुरैना विधानसभा क्षेत्र में पर्यटन विभाग द्वारा पर्यटकों के लिए क्या व्यवस्थाएँ की जाती हैं? (घ) पर्यटक विभाग की उदासीनता के कारण मुरैना विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत देश की धरोहर को हो रहे नुकसान के लिए कौन जिम्मेदार है? जिम्मेदारों के विरुद्ध क्या कार्रवाई की जाएगी? मुरैना विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत समस्त पर्यटन धरोहरों को संरक्षित एवं सौंदर्यीकरण यह तो कोई योजना तैयार की गई है? कब तक संरक्षण एवं सौंदर्यीकरण किया जाएगा?
राज्य मंत्री, पर्यटन ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) विभाग द्वारा पर्यटको की सुविधा हेतु मध्यप्रदेश के समस्त पर्यटन स्थलों के प्राकृतिक, धार्मिक, ऐतिहासिक, वन्य जीवन के अतिरिक्त, सांस्कृतिक एवं खान-पान आदि का समय-समय पर प्रचार-प्रसार किया जाता है। पर्यटन स्थल मितावली-पढावली, बटेश्वर और शनिदेव मंदिर आदि का मध्यप्रदेश टूरिज्म द्वारा प्रचार साहित्य तथा सोशल मीडिया के विभिन्न माध्यमों के माध्यम से लगातार प्रचार-प्रसार किया जाता है। (ख) नूराबाद पुरातत्व वर्तमान में कोई योजना विचाराधीन नहीं है। (ग) मुरैना जिले के मितावली पढ़ावली बटेश्वर ककनमठ में पर्यटकों की सुविधाओं हेतु मितावली में पर्यटक सुविधा केन्द्र का कार्य पढ़ावली में पर्यटक सुविधा केन्द्र एवं जन सुविधा का कार्य तथा बटेश्वर में पर्यटक सुविधा केन्द्र का कार्य किया जा रहा है। (घ) जी नहीं। धरोहरों का संरक्षित करने का कार्य किया जा रहा है तथा शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मत्स्य पालकों ऋण
[मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास]
182. ( क्र. 2902 ) डॉ. अभिलाष पाण्डेय : क्या राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मछली पालन के लिए कौन-कौन सी योजनाएं संचालित की जा रही है? मछुआ/मत्स्य पालकों को राष्ट्रीय बैंकों के माध्यम से ऋण की उपलब्धता कराने हेतु क्या नियम/दिशा निर्देश है? (ख) जिन किसानों के पास पूर्व से तालाब निर्मित है, उन्हें मत्स्य पालन हेतु कौन-कौन सी योजनाओं से लाभांवित कराया जा रहा है? क्या उन्हें उक्त तालाबों पर मत्स्य व्यवसाय प्रारंभ करने हेतु अनुदान एवं ऋण संबंधी कोई योजना संचालित की जा रही है? यदि हाँ, तो विस्तृत जानकारी दें। (ग) जिला रायसेन में ऐसे कितने तालाब/डेम है, जिन्हें मत्स्य पालन हेतु लीज पर दिया जाना प्रस्तावित किया जा सकता है? दाहौद डेम की वर्तमान स्थिति क्या है? संचालन की जिम्मेदारी किस के पास कब से है? संचालन संबंधित दस्तावेजों की प्रति देवें।
राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास ( श्री नारायण सिंह पंवार ) : (क) विभाग में संचालित योजनाओं जानकारी एवं मत्स्य पालको को ऋण बैकों के नियमानुसार प्रदाय की जाती है जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ख) विभाग में ऐसी कोई योजना नहीं है। (ग) जिले में 01 नव निर्मित जलाशय पट्टा हेतु प्रस्तावित है। दाहौद जलाशय विभागीय स्वामित्व में है।
संविदा कर्मचारियों/अधिकारियों का वेतन निर्धारण
[स्कूल शिक्षा]
183. ( क्र. 2903 ) डॉ. अभिलाष पाण्डेय : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या समग्र शिक्षा अभियान (पूर्व में राजीव गांधी शिक्षा मिशन/सर्व शिक्षा अभियान) में संविदा पर कार्यरत अधिकारियों/कर्मचारियों के वेतन/वेतनमान का निर्धारण विभाग के प्रस्ताव पर राज्य कार्यकारिणी समिति की बैठक में किया जाता है? क्या वर्तमान में इसी समिति की बैठक में लिए गए अंतिम निर्णय अनुसार उक्त अधिकारियों/कर्मचारियों को वेतन भुगतान किया जा रहा है? यदि नहीं, तो क्यों? (ख) संविदा पर कार्यरत अधिकारियों/कर्मचारियों के चौथे से पांचवे वेतनमान, पांचवे से छठे वेतनमान एवं छठे से सातवे वेतनमान के निर्धारण हेतु निर्णय राज्य कार्यकारिणी समिति की किन-किन बैठकों में लिए गए हैं? बैठकों का एजेंडा एवं पारित निर्णयों की प्रति उपलब्ध कराएं। (ग) वर्तमान में संविदा प्रोग्रामर को किस वेतनमान से वेतन भुगतान किया जा रहा है? क्या 06/06/2003 को मुख्य सचिव, म.प्र. शासन की अध्यक्षता में राज्य कार्यकारिणी समिति की 30वीं बैठक में लिए गए निर्णय अनुसार संविदा प्रोग्रामर के स्वीकृत वेतनमान (पांचवे वेतन आयोग) के आधार पर वेतन का भुगतान क्यों नहीं किया जा रहा? कब तक समिति निर्णय अनुसार वेतन दिया जाएगा? समय-सीमा बताएं। (घ) राज्य कार्यकारिणी समिति की बैठकों में लिए गए निर्णयों को संशोधित करने का अधिकार किस-किस के पास है एवं संशोधन किन मापदंडों के आधार पर किया जाता है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जी हाँ। जी हाँ। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) संविदा पर कार्यरत कर्मचारी नियमित लोकसेवक नहीं होते है। इस कारण इनको नियमित वेतनमान की पात्रता नहीं होती है। समय-समय पर अधिकारी/कर्मचारी के वेतनमान के न्यूनतम स्तर के आधार पर मासिक परिलब्धियॉं का निर्धारण किया जाता है तथा समय-समय पर मंहगाई भत्ते में वृद्धि के आधार पर संशोधित मासिक परिलब्धियों का नियमानुसार भुगतान की कार्यवाही की जाती है। कार्यकारिणी समिति की 30वीं बैठक दिनांक. 16.06.2003 एजेण्डा क्रमांक 2 में तत्समय प्रचलित चतुर्थ वेतनमान से पांचवा वेतनमान के आधार पर समकक्षता का निर्धारण करते हुए निर्देश जारी किये गये। तदुपरांत पुनः कतिपय संविदा कर्मचारियों को पांचवे वेतनमान में तत्कालीन मिशन संचालक द्वारा राज्य कार्यकारिणी अध्यक्ष के अनुमोदन से संशोधन किया गया। पांचवे वेतनमान 8000-13500 में संशोधित करते हुए 5200-20200 कर दिया गया जिसका अनुमोदन कार्यकारिणी समिति के अध्यक्ष तत्कालीन मुख्य सचिव महोदय से 08.07.2003 में लिया गया। संशोधित मानदेय के आधार पर इनके छटवा वेतनमान की समकक्षता का निर्धारण राज्य कार्यकारिणी समिति की 42वीं बैठक दिनांक 22.09.2010 एजेण्डा क्रमांक 5 में लिये गये निर्णयानुसार किया गया। सातवें वेतनमान की समकक्षता का निर्धारण राज्य कार्यकारिणी समिति की बैठक दिनांक 31.08.2023 एजेण्डा क्रमांक 1 में लिये गये निर्णयानुसार किया गया। इनके कार्यवाही विवरण की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) वर्तमान में म.प्र. शासन सामान्य प्रशासन विभाग के आदेश क्रमांक 5-2/2018/1/3 भोपाल दिनांक 22.07.2023 के अनुपालन में म.प्र. समग्र शिक्षा अभियान की राज्य कार्यकारिणी समिति की बैठक दिनांक 31.08.2023 के निर्णय अनुसार संविदा पर कार्यरत अधिकारी/कर्मचारी के नियमित पदों से समकक्षता का निर्धारण करते हुए मैट्रिक्स लेवल का न्यूनतम वेतन में उपभोक्ता मूल्य सूचकांक के आधार पर संशोधित परिलब्धियॉं दिये जाने के निर्णय अनुसार नवीन पारिश्रमिक दिनांक 01.08.2023 से भुगतान किया जा रहा है। राजीव गांधी शिक्षा मिशन की कार्यकारिणी की 30वीं बैठक दिनांक 06.06.2003 को आयोजित नहीं हुई थी अपितु दिनांक 16.06.2003 को आयोजित हुई थी। शेष उत्तरांश (ख) में वर्णित अनुसार। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) समग्र शिक्षा अभियान की नियमावली अनुसार राज्य कार्यकारिणी समिति को समस्त प्रशासनिक, वित्तीय और अकादमिक शक्तियों का प्रयोग करने जिनमें समस्त प्रकार के पदों का निर्माण एवं उन पर नियुक्तियॉं करने की शक्ति सम्मिलित है। मिशन के समस्त मामलों एवं वित्त के प्रबंध का नियंत्रण एवं राज्य शासन के परामर्श से विनमय बनाने इत्यादि की शक्तियॉं है।
मत्स्य विभाग द्वारा संचालित योजनाएं
[मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास]
184. ( क्र. 2909 ) श्री फुन्देलाल सिंह मार्को : क्या राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मत्स्य उद्योग विभाग द्वारा जिला अनूपपुर में कितनी व कौन-कौन सी योजनायें वर्तमान में संचालित की जा रही हैं? संचालित योजनाओं में कौन-कौन हितग्राही पात्र-अपात्र की श्रेणी में आते हैं? योजना की नियमावली की प्रति उपलब्ध करावें। (ख) अनूपपुर जिले में मत्स्य विभाग अंतर्गत 1 अप्रैल, 2022 से प्रश्न दिनांक तक कुल कितना बजट व कौन-कौन सी मद में स्वीकृत किया गया? जारी किये गये बजट में से कौन-कौन से कार्य किये गये हैं? जानकारी उपलब्ध करावें। कार्यों की पूर्ण-अपूर्ण व वर्तमान स्थिति क्या है? जानकारी दें। (ग) पुष्पराजगढ़ विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत प्रश्नांकित अवधि तक कितने जलाशयों एवं ग्रामीण तालाबों का पट्टा मत्स्य पालन हेतु किन-किन मछुआ-सहकारी समिति अथवा स्व-सहायता समूहों को प्रदाय किया गया? कितनों में पट्टा अवधि पूर्ण होने पर पट्टे की कार्यवाही किस स्तर पर लंबित है? सूची उपलब्ध करावें। मछुआ सहकारी समिति का गठन किस आधार पर किन नियमों के तहत किया जाता है, नियम की प्रति उपलब्ध करावें।
राज्य मंत्री, मछुआ कल्याण एवं मत्स्य विकास ( श्री नारायण सिंह पंवार ) : (क) विभाग द्वारा जिला अनूपपुर में संचालित योजनाओं की जानकारी एवं गाइड लाइन जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-अ अनुसार। (ख) 01 अप्रैल, 2022 से प्रश्न दिनांक तक आवंटन व्यय किये गये कार्य एवं कार्यों के पूर्ण अपूर्ण की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-ब अनुसार। (ग) पुष्पराजगढ़ विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत 17 सिंचाई जलाशय एवं 109 ग्रामीण तालाब पट्टे पर दिये गये है जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-स अनुसार।
भवन निर्माण की स्वीकृति
[स्कूल शिक्षा]
185. ( क्र. 2912 ) श्री बृज बिहारी पटैरिया : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा क्षेत्र देवरी के किन-किन माध्यमिक स्कूल, हाई स्कूल एवं हायर सेकेन्डरी स्कूलों में भवन एवं बाउन्ड्रीवॉल निर्माण, अतिरिक्त कक्ष निर्माण की मांग की गई है? कब-कब प्राचार्यों एवं प्रश्नकर्ता द्वारा मांग कर जिला अधिकारी से लेकर मा. मंत्री जी के माध्यम से शासन को प्रेषित किये गये, उन पर अभी तक क्या कार्यवाही हुई? विवरण देवें। (ख) क्या शा. कृषि उ.मा.वि. महाराजपुर., शा.उ.मा.वि. टडा एवं जमुनिया चिखली एवं नाहरमउ में अतिरिक्त कक्ष, प्रयोगशाला भवन, बरामदा आदि की मांग की गई है? यदि हाँ, तो कब तक राशि उपलब्ध करा दी जावेगी? (ग) वि.स. क्षेत्र देवरी के कौन-कौन से स्कूलों को वित्तीय वर्ष 2025-26 में उन्नयन किया जाना प्रस्तावित है? (घ) विधानसभा क्षेत्र देवरी के अंतर्गत भवन विहीन हाई स्कूलों एवं उ.मा. विद्यालयों को भवन निर्माण की स्वीकृति प्रदान की जा रही है? यदि हाँ, तो नाम बतायें। वित्तीय वर्ष 2025-26 में शामिल किया गया है?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्नाधीन विधानसभा क्षेत्र देवरी अंतर्गत हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट पर है, प्राचार्य द्वारा दिनांक 05/08/2024 और 06/08/2024 एवं माननीय विधायक द्वारा दिनांक 18/07/2024 को पत्र प्राप्त हुए है। प्रश्नाधीन शासकीय उमावि रसैना में अधोसंरचना सुदृढ़ीकरण अंतर्गत 06 अतिरिक्त कक्ष तथा हाई स्कूल चिरचिटा सुखजू में 04 अतिरिक्त कक्ष, कम्प्यूटर कक्ष, पुस्तकालय कक्ष, शौचालय आदि स्वीकृत किये गये है। विधानसभा क्षेत्र देवरी अंतर्गत 112 माध्यमिक शालायें संचालित है। समस्त शालाओं में पर्याप्त भवन एवं अतिरिक्त कक्ष उपलब्ध है। कोई भी माध्यमिक शाला भवन विहीन नहीं है, 39 माध्यमिक शालाये बाउन्ड्रीवाल विहीन है। बाउन्ड्रीवाल निर्माण हेतु म.प्र.राज्य रोजगार गारंटी परिषद के पत्र क्र/5129/MGNREGS-MP/NR-3/2020 पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग द्वारा किया जाता है। (ख) जी हाँ। विद्यार्थी नामाकंन के अनुसार अतिरिक्त आवश्यकता होने पर उपलब्ध बजट अनुसार अधोसंरचना सुदृढ़ीकरण कार्य बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। अतः निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) शाला उन्नयन कार्य बजट कर उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। (घ) जानकारी उत्तरांश (ख) अनुसार है। अतः शेषांश उद्भूत नहीं होता।
राजस्व महाअभियान के अंतर्गत किये गये कार्य
[राजस्व]
186. ( क्र. 2916 ) श्री राजेन्द्र भारती : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन द्वारा राजस्व महाअभियान क्र. 1, 2, 3 चलाया गया/लागू किया गया है? यदि हाँ, तो जनहित में कौन-कौन से राजस्व एवं अन्य कार्य संपादन किये गये हैं? कृपया अलग-अलग विस्तृत जानकारी दें। (ख) उक्त अभियानों के अंतर्गत दतिया जिला में राजस्व संबंधी एवं अन्य कार्य संपादित किये गये? यदि हाँ, तो क्या शासन द्वारा कराये गये ड्रोन सर्वे के पश्चात् राजस्व कर्मचारियों द्वारा मौका पर पट्टाधारियों/कब्जाधारियों/मालिकों के नाम राजस्व पत्रकों में दर्ज किये गये हैं? यदि हाँ, तो कृपया ग्रामवार सूचियां एवं तहसीलवार अलग-अलग जानकारी देते हुये रिपोर्ट/प्रतिवेदनों की प्रतियां उपलब्ध कराये। (ग) दीपक शुक्ला तहसीलदार दतिया/बसई में कब से कब तक पदस्थ रहे हैं? कृपया कार्यकाल में न्यायालयीन मामलों की समस्त जानकारी देते हुए इंदरगढ़ तहसील में फर्जी रजिस्ट्री और नामांतरण के संबंध में तत्कालीन कलेक्टर श्री प्रकाश जांगरे द्वारा पत्र क्र. एस.टी.एफ./जांच/4141/2015 दिनांक 13.08.2015 के संबंध में आयुक्त ग्वालियर/ शासन द्वारा क्या कार्यवाही की गई है? कृपया जांच प्रतिवेदन सहित कार्यवाही से अवगत कराये तथा वर्ष 2022 से प्रश्न दिनांक तक जिले की तहसील न्यायालयों में नामांतरण/बंटवारा/सीमांकन के कितने-कितने आवेदन-पत्र/फाइलें प्राप्त हुई है तथा कितने-कितने आवेदन पत्रों/फाइलों के निराकरण/आदेश हुए है एवं कितने-कितने आदेशों का क्रियान्वयन (अमल) किया गया है। कृपया दायरा रजिस्टर एवं प्रकरणों में संलग्न दस्तावेजों एवं आदेशों की प्रतियों सहित संपूर्ण जानकारी दें। (घ) वीरेन्द्र कटारे एस.डी.एम. दतिया कब से कब तक पदस्थ रहे हैं? कृपया कार्यकाल में न्यायालयीन मामलों की समस्त जानकारी सहित वर्ष 2022 से प्रश्न दिनांक तक एस.डी.एम. न्यायालय में नामांतरण/बंटवारा/सीमांकन सहित खाद्य विभाग (पीडीएस) क्र./अ.वि.अ./25/705 दिनांक 08.01.2025 एवं अन्य मामले/प्रकरण कितने-कितने पंजीबद्ध हुये हें? कृपया दायरा रजिस्टर एवं प्रकरणों में संलग्न दस्तावेजों एवं आदेशों की प्रतियां उपलब्ध करायें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) जी हाँ। जनहित में नामांतरण, बंटवारा, सीमांकन, अभिलेख दुरुस्ती, परंपरागत रास्तो का चिन्हांकन, नक्शा बटांकन, प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना, स्वमित्वा योजना, फार्मर आई.डी. क्रिएशन के राजस्व एवं अन्य कार्य संपादन किये गये हैं। (ख) राजस्व महाअभियान के तहत शासन द्वारा निर्देशित राजस्व संबंधी कार्य संपादित किये गये है। राजस्व अभियान 3.0 दौरान ड्रोन सर्वे के पश्चात स्वामित्व योजनान्तर्गत 12 ग्रामों का द्वितीय प्रकाशन किया गया। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट–'अ' अनुसार। (ग) श्री दीपक शुक्ला तहसीलदार दतिया के पद पर दिनांक 30 जून, 2015 से 12 मई, 2018 तक पदस्थ रहे है। वर्ष 2022 से आज दिनांक तक चाही गई जानकारी निम्नानुसार है :-
मद |
दर्ज |
निराकृत |
नामांतरण |
87754 |
80129 |
बंटवारा |
4904 |
4303 |
सीमांकन |
4473 |
4433 |
(घ) श्री वीरेन्द्र कटारे डिप्टी कलेक्टर अनुविभागीय अधिकारी अनुभाग दतिया के पद पर दिनांक 26.06.2015 से 20.09.2017 एवं दिनांक 11.05.2018 से 15.06.2018 तक पदस्थ रहे है। नामांतरण/ बंटवारा/सीमांकन के प्रकरणों का निराकरण तहसील न्यायालय द्वारा किया जाता है। पत्र क्रमांक क्र./अ.वि.अ./25/705 दिनांक 08.01.2025 के म.प्र. सार्वजनिक वितरण प्रणाली (नियंत्रण) आदेश 2015 की कंडिका की 16 के प्रावधानों के तहत शासकीय उचित मूल्य दुकान डोंगरपुर को जांच उपरांत निलंबित किया गया था। प्रकरणों की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट–'ब' अनुसार।
दतिया गिर्द की भूमि का आधपित्य
[राजस्व]
187. ( क्र. 2917 ) श्री राजेन्द्र भारती : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दतिया गिर्द स्थित भूमि सर्वे नं. 2206 वर्ष 1943-44 एवं 1961-62 से प्रश्न दिनांक तक किसके स्वत्व, स्वामित्व एवं अधिपत्य की है। कृपया शासकीय एवं प्राइवेट भू-स्वामियों के नाम/पता सहित विस्तृत विवरण देते हुए राजस्व पत्रक (खसरा, खतौनी) की प्रति प्रदाय करें। क्या उक्त भूमि में से मैं. रेनू एसोसियट द्वारा अशोक गोयल एवं यश कुमार गोयल द्वारा क्रय की गई थी? यदि हाँ, तो किस वर्ष में क्रय की गई थी? कृपया क्रेता-विक्रेता के नाम/पता सहित नामांतरण पंजी एवं अमल की गई खसरा खतौनी की नकलों सहित भूमि सर्वे नं. और क्षेत्रफल का विवरण दें। (ख) क्या मैं. रेनू एसोसियट द्वारा उक्त भूमि का डायवर्सन एवं तरमीम कराई गई थी? यदि हाँ, तो डायवर्सन एवं तरमीम से संबंधित आवेदन-पत्र/पटवारी/आर.आई. का प्रतिवेदन/आदेश एवं अमल के दस्तावेज उपलब्ध कराये? क्या उक्त भूमि को वर्ष 2024 में क्रय-विक्रय किया गया है। यदि हाँ, तो रजिस्ट्री पत्रक एवं नामांतरण पंजी, खसरा खतौनी की प्रतिलिपि उपलब्ध कराये? क्या उक्त भूमि का विक्रय पंजीयन रजिस्टार द्वारा कलेक्टर गाइड लाइन के अतिरिक्त डायवर्टेड भूमि का राजस्व स्टाम्प की वसूली की गई है। यदि हाँ, तो कृपया अलग-अलग विवरण दें। यदि नहीं, तो क्यों कारण सहित बताये? क्या उक्त भूमि के विक्रेताओं द्वारा क्रेताओं को कब्जा राजस्व अधिकारी-कर्मचारियों द्वारा सीमांकन कर दिलाया गया है। यदि हाँ, तो क्या सीमांकन चौपरा वीट की Compartment history के साथ वन एवं राजस्व विभाग के कर्मचारियों द्वारा किया गया है। यदि नहीं, तो क्यों और यदि हाँ, तो प्रतिवेदन सहित रिपोर्ट की प्रति उपलब्ध कराये। (ग) दतिया जिले में दतिया गिर्द सहित ऐसे और कितने अन्य गिर्द (राजस्व एवं पटवारी हल्का) है जिनके नक्शा और राजस्व रिकार्ड नष्ट जीर्ण-शीर्ण हो गये है। कृपया जानकारी प्रदाय करें। क्या उक्त संबंध में मान. उच्च न्यायालय द्वारा प्र.क्र. W.P. 33964/2024 में आदेश दिया गया है। यदि हाँ, तो उक्त आदेश दतिया गिर्द के संबंध में दिया गया है। क्या रिकार्ड रूम में उपलब्ध राजस्व रिकार्ड (खसरा खतौनी, नवीन नक्शा) वर्ष 1961-62, 1962-63 से 2017-2018 को आधार मानकर तैयार किया जा रहा है। यदि नहीं, तो कारण सहित बतायें। यदि हाँ, तो जानकारी प्रदाय करें। क्या उक्त आदेश के परिप्रेक्ष्य में दतिया गिर्द के अतिरिक्त अन्य गिर्दो के नष्ट हुये नक्शों में सुधार किया जायेगा? यदि नहीं, तो क्यों और यदि हाँ, तो कब तक? विवरण दें। (घ) क्या उदगुवां सर्किल के डांगकरैरा-पलोथर सहित बसई में किये गये नामांतरण/सीमांकन/बटवारा विगत वर्ष 2022 से प्रश्न दिनांक तक कितने-कितने बंटवारा/ सीमांकन/नामांतरण के आवेदन-पत्र प्राप्त हुये है तथा कितने-कितने आदेश उदगुवां वृत के प्र.क्र. 0129/3-6/2024-25 सहित किये गये है? कृपया सीमांकन में तहसीलदार के आदेश एवं पटवारी और आर.आई. की जांच रिपोर्ट/प्रतिवेदन/फील्ड बुक और नामांतरण में पटवारी एवं आर.आई. की जांच रिपोर्ट/प्रतिवेदन एवं तहसीलदार द्वारा किये गये आदेशों/नोटशीट, पक्षकारों के कथन, आवेदन-पत्र पंजी रिपोर्ट एवं बंटवारा में पटवारी तथा आर.आई. की जांच रिपोर्ट/प्रतिवेदन एवं तहसीलदार द्वारा दिये गये आदेशों/नोटशीट पक्षकारों के कथन, आवेदन-पत्र एवं नक्शा सहित समस्त दस्तावेज उपलब्ध करायें।
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) मौजा दतियागिर्द के सर्वे नम्बर 2206 से संबंधित चाही गई जानकारी निम्नानुसार है:- (1) वर्ष 1943-44 की खतौनी की प्रति संलग्न है। भूमि जंगल दर्ज है। (2) वर्ष 1961-62 का यनि सम्वत 2020 से 2030 तक खसरा पूर्ण तरह जीर्ण-शीर्ण होने के कारण नकल प्रदाय नहीं की गई है। (3) वर्ष 1974-75 से वर्ष 1983-84 तक एवं वर्ष 1989-90 से वर्ष 1994 तक की खसर प्रति जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'अ' अनुसार (4) वर्ष 1995 से वर्ष 2005 तक के खसरा सर्वे नं. 2206 के पूर्ण तरह जीर्ण-शीर्ण होने के कारण नकल प्रदाय नहीं की गई है। (5) वर्ष 2006-07 से वर्ष 2010-11 तक की खसरा प्रति संलग्न है। उक्त भूमि सर्वे नं. 2206 पर रेनू एसोसियट एवं अशोक गोयल एवं यश कुमार गोयल के नाम पर भूमि दर्ज नहीं है, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'अ' अनुसार। क्रेता विक्रेता के संबंध में उप पंजीयक कार्यालय दतिया के पत्र क्रमांक 51/उ.प./वि.स./2025 दतिया दिनांक 08.03.2025 द्वारा दी गई जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'ब' अनुसार है। (ख) प्रश्न क्रमांक (क) के अनुसार सर्वे नं. 2206 में रेनू एसोसियट का नाम दर्ज नहीं है। सर्वे नं. 2206 में रेनू एसोसियट द्वारा वर्तमान में कोई डायवर्सन/तरमीम नहीं कराई गई है। उक्त भूमि पर राजस्व अधिकारी/कर्मचारियों द्वारा नाप कर कब्जा नहीं दिलाया गया है और न ही सीमांकन कराया गया है। उप पंजीयक कार्यालय दतिया के पत्र क्रमांक 51/उ.प./ वि.स./2025 दतिया दिनांक 08.03.2025 द्वारा दी गई जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-2 में पृथक से संलग्न है। वन विभाग के पत्र क्रमांक मा.चि./984 दतिया दिनांक 08.03.2025 द्वारा दी गई जानकारी अनुसार वन एवं राजस्व विभाग के कर्मचारियों द्वारा सीमांकन नहीं किया गया है। (ग) जिले में दतियागिर्द एवं इन्दरगढ नगरीय क्षेत्र के नक्शे अति जीर्ण-शीर्ण है। जी हाँ। माननीय उच्च न्यायालय खण्ड पीठ ग्वालियर के प्रकरण क्रमांक W.P. 33964/2024 दतियागिर्द के नक्शे के संबंध में है जिसके आदेश के पालन में गठित दल द्वारा जांच में मिलान का कार्य प्रगतिशील है। वर्ष 1989-90 के राजस्व रिकार्ड से मिलान किया जा रहा है। मिलान का कार्य वर्तमान में प्रगतिशील है। शेष ग्राम इन्दरगढ के नक्शे में भी मिलान का कार्य प्रगतिशील है। (घ) प्रकरण क्रमांक 0129/अ-6/2024-25 की संपूर्ण पत्रावली की प्रमाणित प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'अ' अनुसार है तथा ग्राम डांगकरेरा एवं पलोथर में वर्ष 2022 से प्रश्न दिनांक तक नामांतरण/सीमांकन/ बटवारा की जानकारी निम्नानुसार है:-
ग्राम |
मद |
दर्ज प्रकरण |
निराकृत |
पलोथर/डांगकरेरा |
बटवारा |
10 |
10 |
नामांतरण |
140 |
140 |
|
सीमांकन |
36 |
36 |
राजस्व प्रकरणों की जानकारी
[राजस्व]
188. ( क्र. 2920 ) श्री उमंग सिंघार : क्या राजस्व मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला सागर में वर्तमान में कितने राजस्व प्रकरण लंबित है? (ख) विगत तीन वर्षों में कितने राजस्व प्रकरणों का निराकरण किया गया? वर्षवार जानकारी दें। (ग) प्रश्नांश (ख) के प्रकाश में कलेक्टर कोर्ट की विगत तीन वर्षों में कितनी बैठकें हुई?
राजस्व मंत्री ( श्री करण सिंह वर्मा ) : (क) सागर जिले के राजस्व न्यायालयों में वर्तमान में 13494 राजस्व प्रकरण लंबित है। (ख) सागर जिले के राजस्व न्यायालयों में विगत तीन वर्षों में कुल 281731 प्रकरणों का निराकरण किया गया है। वर्षवार जानकारी- वर्ष 2021-2022- 88691 प्रकरण, वर्ष 2022-2023- 92868 प्रकरण, वर्ष 2023-2024- 100172 प्रकरण। (ग) विगत तीन वर्षों में कलेक्टर कोर्ट की कुल 206 बैठकों (पेशी) में प्रकरण की सुनवाई की गई।
स्कूटी, लैपटॉप प्रदाय की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
189. ( क्र. 2921 ) श्री उमंग सिंघार : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मुख्यमंत्री स्कूटी योजना के अंतर्गत कितने बालक/बालिकाओं को वर्तमान स्थिति में स्कूटी प्रदाय की जानी है? (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में विगत दो वर्षों में कितनी राशि का प्रावधान किया गया तथा कितना आवंटन किया गया? (ग) प्रतिभाशाली विद्यार्थियों को कितने लैपटॉप प्रदाय किये जाना है? वर्तमान स्थिति की जानकारी दें। (घ) विगत दो वर्षों में कितनी राशि का प्रावधान किया गया तथा कितना आवंटन किया गया? (ड.) योजना का प्रचलन कब तक जारी रहेगा?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) वर्तमान स्थिति में लगभग 7832 पात्र छात्र- छात्राओं को स्कूटी प्रदाय की जा रही है। (ख) वित्तीय वर्ष 2023-24 में राशि रू. 93.60 करोड़ एवं वर्ष 2024-25 में राशि रू. 90.00 करोड़ का बजट प्रावधान किया गया था एवं प्रावधानित राशि का आवंटन जारी किया गया। (ग) योजनांतर्गत लैपटॉप का प्रदाय नहीं किया जाता है। शिक्षण सत्र 2023-24 के 89710 पात्र विद्यार्थियों को वित्तीय वर्ष 2024-25 में लैपटॉप हेतु प्रति विद्यार्थी राशि रू. 25000/- विद्यार्थियों के बैंक खातो में प्रदाय की गई। (घ) वित्तीय वर्ष 2023-24 में राशि रू. 46.60 करोड़ का एवं वित्तीय वर्ष 2024-25 में राशि. रू. 229.27 करोड़ का बजट प्रावधान किया गया एवं प्रावधानित राशि का आवंटन जारी किया गया। (ड.) वर्तमान में दोनों योजना संचालित है।
अनुबंध अनुसार भुगतान
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
190. ( क्र. 2928 ) श्री जयवर्द्धन सिंह : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन में अनुबंधित जय अम्बे एमरजेन्सी सर्विसेज द्वारा छत्तीसगढ़ राज्य के नम्बरों की एम्बुलेंस मध्यप्रदेश में चलाई जा रही है? राज्य में एम्बुलेंसों के अनुबंध दिनांक से प्रश्न दिनाक तक परिवहन विभाग को जमा किये गये समस्त टैक्सों से संबंधित जानकारी एवं समस्त गाड़ियों की जानकारी, गाड़ी का नम्बर, पंजीयन क्र., वाहन का प्रकार, वाहन की वैद्यता, प्रश्न दिनांक तक वाहनों की अद्यतन स्थिति सहित संपूर्ण जानकारी का गौशवारा नियमों के सहित बताये। (ख) जय अम्बे इमरजेंसी सर्विसेस को अनुबंध दिनांक से आज दिनांक तक राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन द्वारा सेवा शर्तें पूर्ण नहीं करने पर जारी किये गये नोटिसों एवं अनियमितताओं के संबंध में जारी किये गये समस्त पत्रों की जानकारी उपलब्ध कराये। (ग) राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन में अनुबंधित जय अम्बे इमरजेन्सी सर्विसेस को किये गये अनुबंध दिनाक से प्रश्न दिनांक तक किये गये भुगतान समस्त भुगतानों की जानकारी दें। जिसमें प्राप्त देयक, देयकों का विभागीय अनुमोदन, देयकों का भुगतान सहित समस्त जानकारी गौशवारा बनाकर बताये। (घ) उपरोक्त के संबंध में एम्बुलेंसों के संबंध में प्राप्त शिकायतों पर कृत कार्यवाहियों की संपूर्ण जानकारी दें। (ड.) परिवहन विभाग द्वारा वाहनों के नवीनीकरण, नवीन वाहन पंजीयन के लिये स्मार्ट कार्ड शुल्क लिया जाता है तो कितना शुल्क लेने के उपरांत कार्ड नहीं उपलब्ध कराने पर विभाग कब और किसके विरूद्ध कार्यवाही करेगा? वाहन क्र. एमपी 04/सीई/6518 में नवीनीकरण के बाद स्मार्ट कार्ड जारी किया गया है? यदि नहीं, तो क्यों?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' अनुसार। (घ) एम्बुलेंस के संबंध में प्राप्त शिकायतों पर संस्था को नोटिस जारी किये गये प्राप्त प्रति उत्तर परीक्षण उपरांत की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''इ' अनुसार। (ड.) परिवहन आयुक्त म.प्र. से प्राप्त जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''द'' अनुसार।
बिना परमिट एवं ओवरलोड बसों का संचालन
[परिवहन]
191. ( क्र. 2930 ) श्री सुरेन्द्र सिंह हनी बघेल : क्या परिवहन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्न तिथि में वर्तमान में धार जिले के विधानसभा कुक्षी के डही ब्लॉक के ग्राम अराडा से डही और डही से अराडा सुबह से शाम तक कितनी यात्री बसे व परमिट वाले वाहन चलते हैं? (ख) क्या. उक्त वाहन बिना परमिट से 1998 से चलाये जा रहे है। हाँ या नहीं? यदि हाँ, तो इन पर शासन द्वारा आज तक कार्यवाही क्यों नहीं की गई? यदि नहीं, तो क्या शासन स्तर पर इसकी जांच करवाई जाएगी? (ग) क्या यात्रियों से अवैध वसूली हो रही है और मिलावटी घासलेट से बस चलाकर क्षेत्र में प्रदूषण किया जा रहा है। हाँ या नहीं? यदि हाँ, तो इन बस एवं वाहन संचालकों पर आज तक कोई कार्यवाही क्यों नहीं की गई? यदि नहीं, तो शासन स्तर पर इनकी जांच कब की गई थी व आगे जांच कब करवाई जायेगी? (घ) क्या इन बसों एवं वाहनों द्वारा क्या समय पर टैक्स भरा जा रहा है? भरे जाने वाले टैक्स और फिटनेस एवं परमिट की रसीद उपलब्ध कराने का कष्ट करें। (ड.) क्या उक्त बसों एवं वाहनों में ओवरलडेड यात्रियों को बैठाया जा रहा है एवं ज्वलनशील पदार्थ का परिवहन किया जा रहा हैं? क्या पूर्व में भी इस रूट पर चलने वाली बसों से दुर्घटनाएं और मृत्यु हो चुकी है? पिछले दो वर्षों की जानकारी दें। क्या परिवहन विभाग के अधिकारियों की मिलीभगत से उक्त मार्ग पर बिना परमिट के वाहन चलाए जा रहे हैं? यदि हाँ, तो उन पर कार्यवाही शासन द्वारा क्यों नहीं की जा रही है और यदि नहीं, तो क्या शासन स्तर पर उक्त क्षेत्र में चल रहे बिना परमिट के वाहनों की जांच कर कार्यवाही की जाएगी?
परिवहन मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) प्रश्न तिथि में वर्तमान में धार जिले के विधान सभा कुक्षी के डही ब्लाक के ग्राम अराडा से डही से अराडा सुबह से शाम तक 04 यात्री बसें व परमिट वाले वाहन चलते हैं। (ख) जी नहीं। अति. क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, धार द्वारा समय-समय पर वाहन चैकिंग की कार्यवाही की जाती है तथा बिना परमिट के अपराध सहित मोटरयान अधिनियम एवं नियमों के उल्लंघन में संचालित होते पाये जाने वाले वाहनों के विरूद्ध नियमानुसार चालानी कार्यवाही की जाती है। जिसके परिप्रेक्ष्य में शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) अति. क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, धार द्वारा समय-समय पर की जाने वाली वाहन चैकिंग की कार्यवाही के दौरान यात्रियों से अवैध वसूली एवं मिलावटी घासलेट से बस चलाकर क्षेत्र में प्रदूषण किये जाने संबंधी जांच भी की जाती है तथा नियम विरूद्ध संचालित होते पाये जाने वाले वाहनों के विरूद्ध मोटरयान अधिनियम एवं नियमों के तहत उनके विरूद्ध चालानी कार्यवाही की जाती है। चालू वित्तीय वर्ष में की गई वाहन चैकिंग की कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार है। जिसके परिप्रेक्ष्य में शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) जी हाँ, भरे जाने वाले टैक्स ओर फिटनेस एवं परमिट की रसीद पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''ब'' अनुसार है। (ड.) अति. क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, धार द्वारा समय-समय पर की जाने वाली वाहन चैकिंग की कार्यवाही के दौरान बसों एवं वाहनों में ओवरलोड यात्रियों को बैठाने तथा ज्वलनशील पदार्थ का परिवहन किये जाने संबंधी जांच भी की जाती है तथा नियम विरूद्ध संचालित होते पाये जाने वाले वाहनों के विरूद्ध मोटरयान अधिनियम एवं नियमों के तहत उनके विरूद्ध चालानी कार्यवाही की जाती है। चालू वित्तीय वर्ष में की गई वाहन चैकिंग की कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''अ'' अनुसार है। पूर्व में इस रूट पर चलने वाली बसों से दुर्घटनाएं और मृत्यु के संबंध में पिछले दो वर्षों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट ''स'' अनुसार है। अति. क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, धार द्वारा समय-समय पर वाहन चैकिंग की कार्यवाही की जाती है तथा नियम विरूद्ध संचालित वाहनों के विरूद्ध नियमानुसार चालानी कार्यवाही की जाती है जिसके परिप्रेक्ष्य में शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विधानसभा क्षेत्र में संकुल यथावत रखा जाना
[स्कूल शिक्षा]
192. ( क्र. 2934 ) श्री हरिशंकर खटीक : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) टीकमगढ़ जिले में संकुल केन्द्र पूर्व में कितने और कहां-कहां थे? इसमें कौन-कौन से स्कूल संचालित थे और वर्तमान में कौन-कौन संचालित कर दिये गये, जिससे प्रश्नकर्ता को ग्रामीण के आक्रोश का शिकार भी होना पड़ रहा है और डी.ई.ओ. को दूरभाष पर प्रश्नकर्ता द्वारा बताया भी गया, फिर भी कोई कार्यवाही क्यों नहीं हुई? (ख) प्रश्नांश (क) के आधार पर बताये कि किसके आदेश से इन संकुलों में शा.उ.मा.वि. मुआरा में से तोड़कर नये सिरे से संकुल बना दिये गये हैं, जिससे यहां के शिक्षक, छात्र-छात्रायें एवं ग्रामीण सभी नाराज है? कब तक इसमें सुधार का आदेश जारी कर दिया जावेगा? निश्चित समय-सीमा सहित बतायें। (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के आधार पर बतायें कि शासन विभाग द्वारा पुन: आदेश जारी कर शा.उ.मा.वि. मुआरा को यथावत संकुल पूर्व की भांति रखते हुये प्रश्नकर्ता विधानसभा क्षेत्रों में संकुलों को न मिटाकर पूर्व की भांति संकुलों को निर्धारण करेंगे? शासन ऐसा आदेश कब तक जारी करेंगे?
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। वर्तमान में कार्यवाही पुराने संकुल के आधार पर ही हो रही है। नवीन संकुल केन्द्र निर्धारण को अंतिम रूप नहीं दिया गया है। (ख) संचालनालय के पत्र क्र/एम.आई.एस/ऐजुकेशन पोर्टल/163 भोपाल दिनांक 17.02.2024 के आधार पर जिलें में गठित समिति को अधिकृत किया गया था। टीकमगढ़ जिले में नवीन संकुल निर्धारण की कार्यवाही पूर्ण नहीं हुई है। दूरी के आधार पर पुनरीक्षण कर अंतिम रूप दिया जायेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) उत्तरांश (ख) के आधार पर शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मेडिकल कॉलेज की बाउण्ड्रीवॉल एवं भवन निर्माण का कार्य
[लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा]
193. ( क्र. 2935 ) श्री हरिशंकर खटीक : क्या उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) टीकमगढ़ जिले में मेडिकल कॉलेज खोले जाने हेतु प्रश्नकर्ता द्वारा जनवरी 2020 से प्रश्न दिनांक तक कब-कब विधान सभा में प्रश्न किये गये? कृपया संपूर्ण जानकारी देते हुए यह भी बतायें कि किस प्रश्न के उत्तर में सदन में कब सैद्धांतिक स्वीकृति प्रदान की गई थी? कृपया संपूर्ण जानकारी की छायाप्रति प्रदाय करें। (ख) प्रश्नांश (क) के आधार पर बतायें कि जिले में सरकारी मेडिकल कॉलेज या पी.पी.पी. मोड पर खोले जाने का निर्णय कब किया गया था? सरकारी मेडिकल कॉलेज एवं पी.पी.पी. मोड बनने से शासन की कितनी-कितनी राशि इस पर व्यय होगी? कृपया संपूर्ण जानकारी देते हुये, यह भी बतायें कि जनता को ग्रामीणों को इससे क्या-क्या सुविधायें मिलेंगी? (ग) प्रश्नांश (क) के आधार पर बतायें कि जब सरकारी मेडिकल कॉलेज खोले जाने की स्वीकृति प्राप्त हुई थी, तब पी.पी.पी. मोड पर क्यों खोला जा रहा है? कृपया संपूर्ण जानकारी प्रदाय करें। यह भी बतायें कि इससे संबंधित जिले की जनता को कैसे लाभ मिलेगा? कृपया स्पष्ट बतायें। प्रश्न दिनांक तक शासन ने जो बाउण्ड्रीवॉल निर्माण हेतु राशि स्वीकृत की थी, वह कितनी थी? बाउण्ड्रीवॉल निर्माण क्यों नहीं किया गया है? वह राशि कहां गई? स्पष्ट करें। मेडिकल कॉलेज के लिये किस खसरे नंबर में कितने रकबे में भूमि पूर्व में कहां आवंटित की गई थी और बाद में अब कहां-कहां? कृपया आवंटित भूमियों की छायाप्रति प्रदाय करें। (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) के आधार पर बतायें कि जब मेडिकल कॉलेज टीकमगढ़ की सरकारी बाउण्ड्रीवॉल बनाने विभाग ने राशि स्वीकृत की थी, तो प्रश्न दिनांक तक उपरोक्त कार्य प्रश्न दिनांक तक क्यों प्रारंभ नहीं हुआ है? यह भी बतायें कि जिले में मेडिकल कॉलेज खोले जाने हेतु एवं भवन निर्माण हेतु विभाग द्वारा प्रश्न दिनांक तक की गई अद्यतन जानकारी से अवगत करायें? निश्चित समय-सीमा सहित बतायें? कार्य प्रारंभ किये जायेंगे, तो कब तक?
उप मुख्यमंत्री, लोक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा ( श्री राजेन्द्र शुक्ल ) : (क) टीकमगढ जिले में मेडिकल कॉलेज खोले जाने हेतु प्रश्नकर्ता द्वारा जनवरी 2020 से प्रश्न दिनांक तक तालिका में दर्शाये अनुसार विधानसभा प्रश्न पूछे गये:-
क्रमांक |
विधानसभा सत्र |
विधासभा प्रश्न क्रमांक |
जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''अ'' अनुसार |
1 |
फरवरी-मार्च 2021 |
तारांकित 3850 |
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2 |
दिसंबर-2022 |
तारांकित 1627 |
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3 |
फरवरी-मार्च 2023 |
तारांकित 3402 |
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4 |
फरवरी 2024 |
तारांकित 1293 |
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5 |
जुलाई 2024 |
तारांकित 3036 |
सत्र फरवरी-मार्च, 2024 में पूछे गये तारांकित प्रश्न क्रमांक 1293 के उत्तर में टीकमगढ़ में चिकित्सा महाविद्यालय स्थापित किये जाने की सैद्धांतिक स्वीकृति की जानकारी प्रदान की गई जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''ब'' अनुसार। (ख) पी.पी.पी. मोड पर चिकित्सा महाविद्यालय खोले जाने का निर्णय दिनांक 07.03.2024 को मान्य किया गया जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''स'' अनुसार। टीकमगढ़ में पी.पी.पी. मोड पर चिकित्सा महाविद्यालय स्थापित किये जाने हेतु स्वीकृति प्रदान की गई है, योजना अभी क्रियांवित नहीं की गई है, इसीलिए वर्तमान स्थिति में व्यय बताया जाना संभव नहीं है, पी.पी.पी. मोड पर चिकित्सा महाविद्यालय स्थापित होने पर आमजन को तृतीयक स्तरीय स्वास्थ्य सेवायें उपलब्ध हो सकेंगी। (ग) जी नहीं। उत्तरांश (ख) के अनुसार। बाउण्ड्रीवॉल निर्माण हेतु राशि रूपये 296.95 लाख की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की गई है जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''द'' अनुसार। प्रशासकीय स्वीकृति उपरांत कलेक्टर जिला टीकमगढ़ द्वारा आवंटित की गई भूमि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''ड'' अनुसार। उक्त भूमि पर न्यायालय में याचिका क्रमांक 29472/2003 जवाहरलाल नेहरू कृषि विश्वविद्यालय विरूद्ध म.प्र. शासन की याचिका दायर होने के कारण उच्च न्यायालय द्वारा स्थगन आदेश जारी करने के कारण बाउण्ड्रीवॉल कार्य आरंभ नहीं किया जा सका। उक्त वस्तुस्थिति के परिप्रेक्ष्य में कलेक्टर जिला टीकमगढ द्वारा पुन: प्रकरण क्रमांक 0024/अ-020 (3)/2024-25, आदेश दिनांक 31.12.2024 नवीन भूमि आवंटित की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''च'' अनुसार। राज्य शासन की नीति अनुसार टीकमगढ़ चिकित्सा महाविद्यालय पी.पी.पी. मोड पर स्थापित किये जाने के निर्णय के कारण बाउण्ड्रीवॉल हेतु आवंटित राशि का आहरण नहीं किया गया है, अत: राशि अभी शासकीय कोष में ही सुरक्षित है। आवंटित भूमियों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-''ड'' एवं ''च''' अनुसार। (घ) उत्तरांश (ग) अनुसार। निविदा की गई है। पूर्व में जारी निविदा में किसी निविदाकर्ता के द्वारा निविदा नहीं भरी गयी। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
संग्रहालयों की स्वीकृति
[संस्कृति]
194. ( क्र. 2938 ) श्री उमाकांत शर्मा : क्या राज्य मंत्री, संस्कृति महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में विभाग द्वारा कितने संग्रहालय संचालित किये जा रहे हैं? (ख) 01 अप्रैल, 2020 से प्रश्नांकित दिनांक तक विभाग द्वारा कौन-कौन से निर्माण कार्य स्वीकृत किये गये हैं, कितने पूर्ण, अपूर्ण, अप्रारंभ हैं जानकारी दें? प्रशासकीय स्वीकृति की छायाप्रति उपलब्ध करावें। (ग) क्या तहसील सिरोंज के महामाई मंदिर के पास ग्राम बीरपुर में संग्रहालय स्वीकृत किया गया था? प्रशासकीय स्वीकृति की छायाप्रति उपलब्ध करावें। कितना-कितना बजट कब-कब जारी किया गया? (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में शेष बजट कब तक जारी कर दिया जाएगा?
राज्य मंत्री, संस्कृति ( श्री धर्मेन्द्र भाव सिंह लोधी ) : (क) प्रदेश में विभाग द्वारा 48 संग्रहालय संचालित किए जा रहे हैं। (ख) स्व. जनगढ़ सिंह श्याम, कला केन्द्र, पाटनगढ़ (डिण्डोरी) निर्माणाधीन है एवं स्थानीय संग्रहालय सिरोंज जिला विदिशा एवं गुरूगोविन्द सिंह स्मृति संग्रहालय बुरहानपुर 90 प्रतिशत पूर्ण हो चुके हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'अ' अनुसार। (ग) जी हाँ। प्रशासकीय स्वीकृति की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'अ' अनुसार। इस संग्रहालय भवन का निर्माण, लोक निर्माण विदिशा (PIU) द्वारा किया जा रहा है, जिसके लिए जारी/व्यय की गई राशि (केन्द्रांश+राज्यांश) पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट-'ब' अनुसार। (घ) शेष बजट भारत सरकार से प्राप्त अनुदान पर उपलब्ध कराया जाना है, जिसके लिये आवश्यक कार्यवाही निरन्तर जारी है।
विदिशा जिले में स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा निर्माण कार्य
[स्कूल शिक्षा]
195. ( क्र. 2939 ) श्री उमाकांत शर्मा : क्या स्कूल शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विदिशा जिले में 01 अप्रैल, 2019 से प्रश्नांकित दिनांक तक विभाग द्वारा कौन-कौन से निर्माण कार्य स्वीकृत किये गये, बतावें। प्रशासकीय स्वीकृति की छायाप्रति उपलब्ध करावें? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में कितने पूर्ण, अपूर्ण, अप्रारंभ हैं बतावें तथा कितने कार्य निरस्त किये गये, बतावें? अपूर्ण अप्रारंभ के क्या कारण है? (ग) विकासखण्ड सिरोंज-लटेरी में कौन-कौन से विद्यालय भवन विहीन हैं, बतावें? भवन विहीन विद्यालयों के भवन स्वीकृति हेतु विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई? (घ) हाई स्कूल पिपलियाहाट के भवन निर्माण के लिए भूमि उपलब्ध करवाने हेतु विभाग द्वारा राजस्व विभाग को कब-कब पत्राचार किया? पत्रों की छायाप्रति उपलब्ध करावें।
स्कूल शिक्षा मंत्री ( श्री उदय प्रताप सिंह ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'एक' पर है। (ग) प्रश्नाधीन शासकीय माध्यमिक शालाओं के उन्नयन उपरांत माध्यमिक शालाओं के भवन ही हाईस्कूल भवन है, अतः शेष उद्भूत नहीं होता। शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'दो' पर है। शासकीय हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों में विद्यार्थी नामांकन के अनुसार अतिरिक्त आवश्यकता होने पर उपलब्ध बजट अनुसार अधोसंरचना सुदृढ़ीकरण कार्य किया जाता है। माँग अनुसार बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति अनुसार कार्यवाही की जाती है। शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं के भवन निर्माण कार्य की राशि बजट की उपलब्धता तथा सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट 'तीन' पर है।