मध्यप्रदेश विधान सभा
प्रश्नोत्तर-सूची
फरवरी-मार्च, 2021 सत्र
बुधवार, दिनांक 24 मार्च, 2021
भाग-1
स्थायी
आदेश 13-क
के अनुसरण में
अतारांकित
प्रश्नोत्तर
के रुप में
परिवर्तित
तारांकित
प्रश्नोत्तर
वन
ग्रामों का
राजस्व
ग्राम में
परिवर्तन
[जनजातीय कार्य]
1. ( क्र. 787 ) श्री रामपाल सिंह : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या वन अधिकार अधिनियम 2006 के अनुसार वन ग्रामों को राजस्व ग्रामों में परिवर्तन करने संबंधी की गई कार्यवाही का अध्ययन करने के लिये 6-7 अगस्त 2014 को अधिकारियों का दल छत्तीसगढ़ राज्य के भ्रमण पर गया था? (ख) यदि हाँ, तो उक्त दल ने वन ग्रामों को राजस्व ग्रामों में परिवर्तन के संबंध में क्या-क्या उक्त सुझावों पर विभाग ने क्या-क्या कार्यवाही की? (ग) वन ग्रामों को राजस्व ग्रामों में परिवर्तन करने में विभाग को क्या-क्या कठिनाइयां है? वन ग्राम कब तक राजस्व ग्राम बन जायेंगे? (घ) इस संबंध में जनवरी 2019 से प्रश्न दिनांक तक की अवधि में माननीय मंत्री जी तथा विभाग के अधिकारियों को किन-किन सांसद/विधायकों के पत्र कब-कब प्राप्त हुये तथा उन पर क्या-क्या कार्यवाही की गई?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ। (ख) राज्य स्तरीय वन अधिकार समिति की बैठक दिनांक 2 जुलाई 2015 में अध्ययन दल द्वारा दिये गये प्रतिवेदन पर चर्चा हुई। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र - एक अनुसार है। (ग) अपर मुख्य सचिव मध्यप्रदेश शासन वन विभाग के पत्र दिनांक 5 जून 2017 में वन ग्रामों को राजस्व ग्रामों में परिवर्तन में आ रही कठिनाईयों के संबंध में सचिव भारत सरकार पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय नई दिल्ली निर्देश प्रदान करने हेतु लिखा गया है। संचालनालय आदिम जाति क्षेत्रीय विकास योजनाये भोपाल के पत्र क्रमांक/4380 दिनांक 18.02.2019 द्वारा प्रधान मुख्य वन संरक्षक वन विभाग भोपाल को लिखा गया। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र - दो अनुसार है। वन अधिकार अधिनियम 2006 की प्रक्रिया अर्द्ध न्यायिक स्वरूप की होने से समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (घ) माननीय सांसद एवं विधायकों के प्राप्त पत्र एवं की गई कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- तीन अनुसार है।
शिकायती पत्र पर कार्यवाही
[चिकित्सा शिक्षा]
2. ( क्र. 1883 ) श्री कमलेश्वर पटेल : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) डॉ. अनुज भार्गव, सहायक प्राध्यापक दन्त रोग, गांधी चिकित्सा महाविद्यालय, भोपाल के विरूद्ध फर्जी दस्तावेज के आधार पर शासकीय सेवाओं में आने के संदर्भ में DIG इंदौर जोन, द्वारा की गई जाँच रिपोर्ट क्रमांक/उमनि/ई/शहर/निस/एफ-5/33513/18, दिनांक 05 अगस्त 2018 में दोषी पाया गया था? जाँच रिपोर्ट का विवरण उपलब्ध कराएं? अधिष्ठाता गांधी चिकित्सा महाविद्यालय भोपाल द्वारा इस जाँच रिपोर्ट के फलस्वरूप उनके पत्र क्रमांक 4775-80/एम.सी./13/2018 दिनांक 01.12.2018 को सेवाएं समाप्त करने के लिये सूचना पत्र जारी कर एक माह में अपना मत रखे जाने का लेख किया गया था? (ख) क्या 1 माह की अवधि के भीतर डॉ. अनुज भार्गव द्वारा कोई संतोषजनक जवाब प्रस्तुत किया गया? यदि हाँ, तो विवरण उपलब्ध करावें? यदि नहीं, तो क्या यह गैर कानूनी कृत्य इस बात पर इंगित नहीं करता कि तत्कालीन अधिष्ठाता डॉ. अरूणा कुमार जिनके द्वारा कार्यभार 11 दिसंबर, 2018 को ग्रहण किया गया था, द्वारा अपने पद का दुरूपयोग हुए डॉ. अनुज भार्गव को दोषी पाए जाने के बावजूद एवं उनके द्वारा दी गई एक माह की समय-सीमा में कोई भी संतोषजनक जवाब प्रस्तुत न करने पर भी तत्कालीन अधिष्ठाता के डॉ. अनुज भार्गव से व्यक्तिगत संबंध होने अथवा व्यक्तिगत लाभ प्राप्त करने की दृष्टि से उनकों सेवाओं से पृथक नहीं किया गया? (ग) क्या तत्कालीन अधिष्ठाता डॉ. अरूणा कुमार द्वारा डॉ. अनुज भार्गव को सेवाओं से पृथक न करते हुए 3 माह का अधिक समय नियम विरूद्ध दिया जाकर भोपाल पुलिस से एक अधिकारी द्वारा नियम विरूद्ध दूसरी फर्जी रिपोर्ट तैयार की गई, रिपोर्ट क्रमांक पुमनि/भोजो/अपराध/2019 (18-H) दिनांक 23.02.2019 (प्रतिलिपि उपलब्ध करावें) के आधार पर सेवाओं से पृथक नहीं किया गया, जबकि यह पूरा मामला इंदौर संभाग के अंतर्गत आता है एवं इंदौर संभाग में किये गये फर्जी कार्य भोपाल संभाग के जाँच के दायरे अंतर्गत नहीं आता है? (घ) क्या डॉ. अनुज भार्गव को अधिष्ठाता डॉ. अरूणा कुमार द्वारा बिना किसी जाँच पूर्ण किये एवं शासन अथवा आयुक्त भोपाल संभाग की अनुमति प्राप्त किये बिना उनके विरूद्ध चल रहे समस्त प्रकरण को चुपचाप 2 वर्ष बाद दिसम्बर 2020 में नस्ती बंद कर दिया गया है? यह गैर कानूनी षडयंत्रकारी कृत्य किये जाने पर तत्कालीन अधिष्ठाता डॉ. अरूणा कुमार को उनके वर्तमान प्रभार से तुरंत प्रभाव से कार्यमुक्त किया जाकर एवं उनको निलंबित कर इस पूरे मामले की उच्च स्तरीय समिति गठित कर पुन: जाँच किये जाने के आदेश माननीय चिकित्सा शिक्षा मंत्री द्वारा पारित किये जावे। इसके अतिरिक्त डॉ. अनुज भार्गव को भी तत्काल प्रभाव से निलंबित या किसी अन्य महाविद्यालय में स्थानांतरित किया जावेगा कि वह किसी भी प्रकार से की जा रही जाँच को अपने पद का दुरूपयोग करते हुए प्रभावित न करें?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जी हाँ। जाँच रिपोर्ट का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। जी हाँ। (ख) जी हाँ। विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। उपरोक्त के परिप्रेक्ष्य में कार्यवाही किये जाने का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नही। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 एवं 4 अनुसार है। (घ) जी नहीं। अधिष्ठाता द्वारा संपूर्ण जाँच प्रासंगिक नियमों, शासन से प्राप्त दिशा निर्देश व बिना किसी पूर्वाग्रह से ग्रसित हुए प्राकृतिक न्याय के सिद्धांत के अनुरूप नस्तिबद्ध किया गया। शेष प्रश्न उत्पन्न नहीं होता।
संभावित पेंशन प्रकरणों का निराकरण
[सामाजिक न्याय एवं निःशक्तजन कल्याण]
3. ( क्र. 2308 ) श्री रामपाल सिंह : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पोर्टल पर प्रथम दृष्टया पेंशन हेतु पात्र संभावित हितग्राहियों की सूची प्रतिमाह ऑनलाईन उपलब्ध कराने का क्या उद्देश्य है उक्त संभावित पात्र हितग्राहियों के प्रकरणों के निराकरण हेतु किस-किस स्तर पर कौन-कौन अधिकारी जवाबदार हैं? (ख) दिसम्बर 2020 एवं माह जनवरी, फरवरी 2021 में रायसेन जिले में पोर्टल पर प्रथम दृष्टया पेंशन हेतु पात्र कितने-कितने संभावित हितग्राही दिख रहे थे तथा उक्त प्रकरणों का निराकरण क्यों नहीं किया गया? (ग) पोर्टल पर प्रथम दृष्टया पेंशन हेतु पात्र संभावित हितग्राहियों के प्रकरणों का प्रतिमाह निराकरण हो इस हेतु विभाग क्या-क्या कार्यवाही करेगा? (घ) प्रश्नांश (क) के संबंध में मान. मंत्री जी तथा विभाग के अधिकारियों को प्रश्नकर्ता विधायक के पत्र 1 जनवरी 2019 से प्रश्न दिनांक तक कब-कब प्राप्त हुए तथा उन पर क्या-क्या कार्यवाही की गई, की गई कार्यवाही से प्रश्नकर्ता विधायक को कब-कब अवगत कराया, पूर्ण विवरण दें।
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) पोर्टल पर प्रथम दृष्टयां पेंशन हेतु पात्र व्यक्तियों की सूची प्रतिमाह ऑनलाईन उपलब्ध कराने का उदेश्य पोर्टल पर प्रदर्शित संभावित पात्र व्यक्तियों का भौतिक सत्यापन उपरांत पात्रता अनुसार लाभ प्रदाय कराया जाता है। संभावित पात्र व्यक्तियों के प्रकरण दस्तावेज के आधार पर निराकरण हेतु संबंधित क्षेत्र के स्थानीय निकाय प्रमुख/ग्राम पंचायत सचिव/वार्ड प्रभारी जबाबदार है। (ख) दिसम्बर 2020 एवं माह जनवरी, फरवरी 2021 की स्थिति में रायसेन जिले में पोर्टल पर प्रदर्शित प्रथम दृष्टयां पेंशन हेतु संभावित पात्र व्यक्तियों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। पोर्टल पर प्रदर्शित संभावित पात्र व्यक्तियों में से भौतिक सत्यापन उपरांत प्राय: सभी पात्र व्यक्तियों को लाभ दिया गया है। (ग) पोर्टल पर प्रथम दृष्टया पेंशन हेतु पात्र संभावित व्यक्तियों के प्रकरणों का प्रतिमाह निराकरण हो इस हेतु आयोजित समीक्षा बैठकों एवं पत्राचार के माध्यम से संभावित निकायों को निर्देशित किया जाकर प्रकरणों का प्रतिमाह निराकरण किये जाने का प्रयास किया जा रहा है। (घ) प्रश्नांश (क) के संबंध में माननीय प्रश्नकर्ता विधायक महोदय के जनवरी 2019 से प्रश्न दिनांक तक कोई भी पत्र इस कार्यालय स्तर पर प्राप्त नहीं हुआ है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
केम्पा के अंतर्गत व्यय राशि
[वन]
4. ( क्र. 2367 ) श्री देवेन्द्र सिंह पटेल : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रायसेन एवं सागर जिले में केम्पा मद (CAMPA) में वर्ष 2018-19 से प्रश्न दिनांक तक कितनी-कितनी राशि कब-कब प्राप्त हुई? (ख) उक्त राशि से क्या-क्या कार्य किसकी अनुमति से कहाँ-कहाँ करवाये गये? (ग) उक्त कार्यों में से कौन-कौन से कार्य कब-कब पूर्ण हुए तथा कौन-कौन से कार्य अपूर्ण एवं आप्रारंभ है तथा क्यों उक्त कार्य कब तक पूर्ण होंगे? (घ) प्रश्नांश (क) के कार्यों में अनियमितताओं की किन-किन माध्यमों से शिकायतें प्राप्त हुई तथा उक्त शिकायतों पर आज दिनांक तक क्या-क्या कार्यवाही की गई पूर्ण विवरण दें?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। उक्त कार्य राज्य स्तरीय संचालन समिति तथा भारत सरकार से अनुमोदित वार्षिक प्रचालन योजना के अनुसार कराये गये हैं। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट पर है। (घ) उत्तरांश (क) के कार्यों में वनमंडल औबेदुल्लागंज अंतर्गत अनियमितताओं की शिकायत सी.एम. हेल्पलाईन के माध्यम से प्राप्त हुई तथा सागर जिले के अंतर्गत अनियमितताओं की जाँच का पत्र मंत्री नगरीय विकास एवं आवास मध्यप्रदेश शासन तथा अपर प्रधान मुख्य वन संरक्षक (सतर्कता/शिकायत) के माध्यम से प्राप्त हुई है। उक्त शिकायतों पर की गई कार्यवाही का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट में दर्शाया गया है।
स्कूल के स्वीकृत रिक्त पदों पर भर्ती
[स्कूल शिक्षा]
5. ( क्र. 2498 ) श्री लखन घनघोरिया : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जबलपुर जिले की स्कूल शिक्षा विभाग की शालाओं में माध्यमिक एवं उच्चतर माध्यमिक 10-12 की शालाओं में विषयवार शिक्षकों के स्वीकृत कितने-कितने पद रिक्त है? इन पदों को भरने हेतु शासन की क्या योजना है। (ख) प्रदेश में माह फरवरी-मार्च 2019 में शिक्षकों के कितने स्वीकृत रिक्त पदों की भर्ती हेतु आयोजित पात्रता परीक्षा में विषयवार कितने-कितने अभ्यार्थियों ने भाग लिया? शासन ने इनसे आवेदन शुल्क के रूप में किस मान से कितनी राशि वसूल की है? (ग) प्रश्नांकित पात्रता परीक्षा का परिणाम कब किया गया। इसमें विषयवार कितने-कितने अभ्यार्थी सफल घोषित किये गये। इनकी मेरिट व वेटिंग सूची कब जारी की गई और इनके दस्तावेजों का सत्यापन कब कराया गया? (घ) प्रश्नांकित मेरिट सूची के अनुसार विषयवार कितने-कितने अभ्यार्थियों को नियुक्ति पत्र कब जारी किये गये एवं कितने अभ्यार्थियों को कब से नियुक्ति पत्र जारी नहीं किये गये हैं एवं क्यों? इन्हें कब तक नियुक्ति पत्र जारी किये जावेगें। इस संबंध में शासन में क्या निर्देश हैं?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार। उच्च माध्यमिक शिक्षक एवं माध्यमिक शिक्षक की भर्ती प्रक्रिया प्रचलित है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार शिक्षक पात्रता परीक्षा 2018 में आरक्षित श्रेणी के अभ्यर्थियों से 250 रुपये एवं अनारक्षित श्रेणी के अभ्यर्थियों से 500 रुपये की दर से कुल राशि रुपये 277204500/- प्राप्त हुई। (ग) उच्च माध्यमिक शिक्षक एवं माध्यमिक शिक्षक पद की शिक्षक पात्रता परीक्षा 2018 के परिणाम क्रमश: दिनांक 28 अगस्त 2019 एवं 26 अक्टूबर 2019 को घोषित किये गये। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार। स्कूल शिक्षा विभाग अन्तर्गत उल्लेखित पदों की प्रावधिक चयन सूची एवं प्रावधिक प्रतीक्षा सूची क्रमश: दिनांक 20.02.2020 एवं 29.02.2020 को जारी की गई, उच्च माध्यमिक शिक्षक पद के अभ्यर्थियों के दस्तावेज सत्यापन का प्रथम चरण दिनांक 01.07.2020 से 03.07.2020 तक हुआ है। (घ) कोरोना महामारी (कोविड-19) के कारण दस्तावेज सत्यापन प्रक्रिया दिनांक 04.07.2020 से स्थगित की गई थी। वर्तमान में माननीय उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा नियुक्ति आदेश पर स्थगन दिया है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
छात्रावासों की जाँच
[अनुसूचित जाति कल्याण]
6. ( क्र. 3233 ) श्री राकेश मावई : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) जिला मुरैना अन्तर्गत अनुसूचित जाति के छात्रावास कहाँ-कहाँ पर संचालित हैं? वर्तमान में इनके अधीक्षक कौन-कौन है और कब से हैं? वर्ष 2017 से प्रश्न दिनांक तक कितने-कितने छात्र/छात्राओं को इन छात्रावासों में प्रवेश दिया गया? वर्षवार जानकारी देवें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार संचालित छात्रावासों में छात्र/छात्राओं को क्या-क्या सुविधायें उपलब्ध करायी जाती हैं? क्या उक्त सभी सुविधायें वर्णित छात्रावासों में उपलब्ध करायी गयी? यदि नहीं, तो कौन-कौन सुविधा क्यों उपलब्ध नहीं करायी गयी? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार अनुसूचित जाति छात्रावासों के लिये वर्ष 2017 से प्रश्न दिनांक तक कितनी-कितनी राशि कब-कब किस-किस मद/योजना से प्राप्त हुई? वर्षवार योजनावार राशि की जानकारी देवें। (घ) वर्ष 2017 से प्रश्न दिनांक तक प्रश्नांश (क) अनुसार छात्रावासों में क्या-क्या सामग्री कितनी-कितनी मात्रा में कब किसके द्वारा कहाँ-कहाँ से कितनी-कितनी राशि में क्रय की गयी? राशि का भुगतान किसके द्वारा किस-किस मद की राशि से किया गया। इन छात्रावासों से संबंधित कितनी शिकायतें कब किसके द्वारा की गयीं तथा उन शिकायतों पर क्या कार्यवाही की गयी जानकारी देवें।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। (ख) अनुसूचित जाति छात्रावासों में छात्र-छात्राओं को नि:शुल्क आवास सुविधा, बिस्तर सामग्री, भोजन व्यवस्था, शुद्ध पेयजल हेतु आर.ओ., डायनिंग टेबिल, एल.ई.डी. उत्कृष्ट छात्रावासों में कोचिंग व्यवस्था, स्टेशनरी की सुविधा, योजनांतर्गत बजट की सीमा में उपलब्ध कराई जाती है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'स' अनुसार है। सामग्री भण्डार क्रय नियम अनुसार शासकीय उपक्रमों से क्रय की गई। जिसका जिला स्तर पर गठित क्रय समिति से भौतिक सत्यापन पश्चात् कलेक्टर से भुगतान की स्वीकृति प्राप्त कर संबंधित शासकीय उपक्रमों को भुगतान किया गया। इस संबंध में कार्यालय को किसी भी प्रकार की कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जेम/ई-मार्केटिंग से खरीदी गई औषधि की जानकारी
[चिकित्सा शिक्षा]
7. ( क्र. 3403 ) श्री देवेन्द्र सिंह पटेल : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) राजधानी के हमीदिया चिकित्सालय के केन्द्रीय औषधि भंडार में 1 जनवरी, 2019 से सितम्बर, 2020 तक जेम/ई-मार्केटिंग के द्वारा क्या-क्या खरीदारी हुई एवं कितनी-कितनी राशि की खरीदारी हुई एवं किस-किस फर्म से खरीदारी हुई? फर्म का नाम तथा राशि बताएं। (ख) 01 जनवरी, 2019 से सितम्बर, 2020 तक केन्द्रीय औषधि भंडार का स्टोर कीपर कौन था एवं इनके द्वारा क्या-क्या सामग्री प्राप्त की गई तथा भुगतान किस-किस फर्म को कितना-कितना किया गया? पृथक-पृथक बताएं। (ग) क्या निम्न गुणवत्ता की सामग्री स्वास्तिक मेडिकल स्टोर से प्राप्त की गई एवं इनके द्वारा जनवरी, 2019 से सितम्बर, 2020 तक कितनी राशि की सामग्री चिकित्सालय को प्रदान की गई एवं इनको कितना भुगतान किया गया। (घ) क्या शासन उपरोक्त अनुसार निम्न गुणवत्ता की सामग्री प्राप्त कर लाखों रुपयों की अनियमितताएं एवं भ्रष्टाचार करने वाले तत्कालीन स्टोर कीपर को निलंबित कर जाँच कराएगा?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) 01 जनवरी 2019 से सितम्बर 2020 तक केन्द्रीय औषधि भण्डार, भोपाल में श्री सूती वर्मा, फार्मासिस्ट ग्रेड-2, प्रभारी स्टोर कीपर पदस्थ थे। क्रय सूची अनुसार प्राप्त की गई सामग्री की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। हमीदिया चिकित्सालय भोपाल में उक्त अवधि में फर्म को किये गये भुगतान की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है। (ग) जी नहीं। 01 जनवरी 2019 से सितम्बर, 2020 तक चिकित्सालय को प्रदान की गई सामग्री की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-4 अनुसार है। स्वास्तिक मेडिकल स्टोर को किये गये भुगतान की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-5 अनुसार है। (घ) निम्न गुणवत्ता की सामग्री प्राप्त नहीं की गई। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अनुकम्पा नियुक्ति के लंबित प्रकरण
[स्कूल शिक्षा]
8. ( क्र. 3766 ) श्री जयवर्द्धन सिंह : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) गुना एवं सिंगरौली जिले में अनुकंपा नियुक्ति के कितने प्रकरण लंबित हैं? किस-किस पद हेतु कब-कब आवेदन किया गया एवं कितने समय से अनुकंपा प्रकरण लंबित है? जिलेवार पृथक-पृथक ब्यौरा दें। (ख) उपरोक्त के संबंध में स्कूल शिक्षा विभाग का पत्र क्र. एफ 1-10/2021/20-1 दिनांक 01/02/2021 में स्कूल शिक्षा एवं सा.प्रा.विभाग के किस-किस नियमों/आदेशों का पालन अथवा संशोधन अथवा छूट का हवाला देकर पत्र जारी किया गया है? पृथक-पृथक ब्यौरा दें। पत्र में निर्देशों/नियमों को किस-किस की अनुमति किस-किस प्रावधान, किस-किस आधार पर बदला अथवा अंगीकृत किया गया? यदि नहीं, तो इसके लिये कौन-कौन जिम्मेदार है? (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में क्या उक्त आदेश के तारतम्य में अनुकंपा नियुक्ति के प्रकरण उक्त पद के लिये प्राप्त हुये हैं? यदि हाँ, तो कब-कब, कितने-कितने आवेदक का नाम, पता, जिला, आवेदन पत्र प्रस्तुत करने का दिनांक सहित जिलेवार पृथक-पृथक बतायें। यदि नहीं, तो जिला शिक्षाधिकारी सिंगरौली द्वारा किस आधार पर अनुकंपा नियुक्ति के आदेश जारी किये हैं? अनुकंपा नियुक्ति के आदेश किस कार्यालय के किस अधिकारी द्वारा जारी किये जाने के प्रावधान हैं? स्पष्ट करें। (घ) विभाग द्वारा संविदा या प्राथमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा वर्ष 2012 से नहीं आयोजित करने के लिये कौन-कौन जिम्मेदार हैं, जिसके कारण अनुकंपा नियुक्ति के प्रकरण प्रदेश में लंबित हैं? प्राथमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा 2020 के परीक्षा फार्म भरने के बाद प्रश्न दिनांक तक परीक्षा नहीं आयोजित होने के क्या कारण है? विभाग द्वारा परीक्षा आयोजित करने के लिये कब-कब, क्या-क्या कार्यवाही की है? पृथक-पृथक बतायें। (ड.) उपरोक्त के संबंध में गुना में अनुकंपा नियुक्ति के लंबित प्रकरण जिसमें आवेदक अपात्र, प्रकरण अमान्य, लंबित, आर्थिक सहायता के कारण पात्रता से बाहर हो गये हैं को अवसर प्रदान किया जायेगा? यदि हाँ, तो क्या कार्यवाही की जायेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। (ख) स्कूल शिक्षा विभाग के पत्र क्रमांक एफ 1-10/2021/20-1 भोपाल दिनांक 01.02.2021 में म.प्र.शासन, सामान्य प्रशासन विभाग के ज्ञाप दिनांक 29.09.2014 की कंडिका 6.3 का उल्लेख है पत्र की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार है। उक्त नवीन निर्देष प्रशासकीय अनुमोदन उपरांत शासन स्तर से जारी किये गये है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-तीन अनुसार है। भर्ती नियम अनुसार प्राथमिक शिक्षक, प्रयोगशाला शिक्षक एवं भृत्य पद के नियुक्तिकर्ता अधिकारी जिला शिक्षा अधिकारी है। (घ) शालाओं में शिक्षकों के रिक्त पद की उपलब्धता एवं आवश्यकता के आधार पर शिक्षकों की नियुक्ति हेतु पात्रता परीक्षा आयोजित की जाती है। प्राथमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा वर्ष 2020 के आयोजन हेतु पी.ई.बी. से विधिवत अनुरोध किया गया है। पी.ई.बी. द्वारा आवेदन पत्र प्राप्त कर लिये गये है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ड.) अनुकंपा नियुक्ति हेतु प्रचलित निर्देशों के तहत पात्र होने पर लाभ दिया जाता है अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजना
[जनजातीय कार्य]
9. ( क्र. 3813 ) श्री लखन घनघोरिया : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) सहायक आयुक्त आदिवासी कल्याण विभाग जिला जबलपुर को अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजना के तहत शासन ने कितनी-कितनी राशि के कौन-कौन से विकास एवं निर्माण कार्यों हेतु कितनी-कितनी राशि की वित्तीय एवं प्रशासकीय स्वीकृति दी हैं? इन कार्यों हेतु कितनी-कितनी राशि आवंटित की गई एवं कितनी-कितनी राशि कब से आवंटित नहीं की गई है एवं क्यों? वर्ष 2017-18 से 2020-21 तक की पृथक-पृथक जानकारी दें। (ख) प्रश्नांकित किन-किन विकास एवं निर्माण कार्यों हेतु निर्माण एजेंसी का निर्धारण कब किया गया। कितनी-कितनी राशि के कौन-कौन से कार्य कब-कब किस निर्माण एजेंसी से कराये गये है एवं कौन-कौन से कार्य कब से नहीं कराये गये है एवं क्यों? (ग) क्या प्रश्नांकित स्वीकृत सभी निर्माण विकास कार्यों को कराना एवं अनुसूचित जाति वर्ग को विकास एवं प्रगति की मूल धारा में जोड़ना शासनकी प्राथमिकता है या नहीं? यदि हाँ, तो शासन कब तक राशि का आवंटन कर कार्यों को कराया जाना सुनिश्चित करेगा?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) से (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
पशुपालकों द्वारा उत्पादित दुग्ध विपणन की सुविधा
[पशुपालन एवं डेयरी]
10. ( क्र. 3835 ) श्री हर्ष यादव : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भोपाल एवं सागर संभाग में पशुपालकों द्वारा उत्पादित दुग्ध के विपणन की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए त्रिस्तरीय डेयरी व्यवस्था के अंतर्गत जिला एवं ग्रामीण स्तर पर दुग्ध संघ एवं प्राथमिक सहकारी समितियों एवं कलेक्शन सेंटरों की स्थापना की गई है? यदि हाँ, तो उक्त संभाग में कुल शासकीय, अशासकीय एवं अर्धशासकीय कितनी सहकारी समितियां एवं महिला समितियां इस क्षेत्र में कार्य कर रही हैं, उनके द्वारा उत्पादकों से दुग्ध कलेक्शन, एवं मूल्य का निर्धारण किस पद्धति से किया जाता है? व्यवस्था के सतत् संचालन एवं निगरानी के लिए विभाग की क्या व्यवस्था है? (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में क्या विभाग द्वारा प्राथमिक दुग्ध समितियों के कलेक्शन सेंटरों पर डिजीटल मशीनों द्वारा दुग्ध के फेट एवं एस.एन.एफ. मात्रा की जाँच कर मूल्य निर्धारित किए जाने के प्रावधान किए गये हैं? यदि हाँ, तो बताये, कि विभाग द्वारा विगत दो वर्ष में किस-किस कंपनियों की कौन-कौन सी मशीनों को मानकों पर सही पाया गया है एवं कब इनके प्रयोग की स्वीकृति प्रदान की गई है? यदि नहीं, तो क्या कारण है, कि ग्रामीण क्षेत्रों में दुग्ध समितियों के कलेक्शन सेंटरों पर इनका प्रयोग किया जा रहा है? क्या विभाग इस मामले की जाँच करवाकर दोषियों पर कार्यवाही कर उक्त मशीनों के प्रयोग पर रोक लगायेगा? यदि हाँ, तो यह कब तक होगी? यदि नहीं, तो किन कारणों से नहीं होगी?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी हाँ। भोपाल संभाग में 1703 एवं सागर संभाग में 640 दुग्ध सहकारी समितियां कार्यरत हैं, जिनमें से क्रमश: 325 एवं 157 महिला दुग्ध समितियां कार्य कर रहीं है। दुग्ध उत्पादकों से दूध सहकारी दुग्ध समितियों के माध्यम से संकलित किया जाता है। सागर संभाग अंतर्गत केवल सागर जिले को छोड़कर शेष समस्त जिलो में अशासकीय दुग्ध समितियों की संख्या निरंक है। सागर जिले में इनकी संख्या मात्र दो है। 1. मुक्ता डेयरी फार्म प्रोड्युसर देवरी। 2. देवश्री डेयरी फार्म प्रोड्युसर केसली। भोपल संभाग में 3 अशासकीय दुग्ध समितियां संचालित है। इनके द्वारा उत्पादकों से ग्राम स्तर पर दूध क्रय किया जाता है। राजगढ़ जिले में मालव महिला मिल्क प्रोड्युसर कंपनी जावरा एवं ऑस्टर डेयरी विकासखण्ड नरसिहगढ़ में अर्द्शासकीय समिति द्वारा दुग्ध संग्रहण का कार्य जिले में किया जा रहा है। भोपाल जिले में एक अशासकीय संस्था शुधम डेयरी द्वारा भी दुग्ध संग्रहण का कार्य किया जा रहा है, इसके अतिरिक्त सीहोर रायसेन एवं विदिशा में कोई अशासकीय समिति कार्यतर नहीं है। प्रदायकों से क्रय दूध के मूल्य का निर्धारण दूध की मात्रा,फैट एवं सी.एल.आर. के आधार पर एस.एन.एफ. की गणना कर किया जाता है। भैस एवं गाय के दूध के मूल्य का निर्धारण पृथक-पृथक पद्धति से किया जाता है। भैस के दूध में फैट के आधार पर दूध के मूल्य का निर्धारण होता है, जबकि गाय के दूध में फैट के साथ-साथ एस.एन.एफ. की भी डबल एक्सेस पद्धति कुल ठोस पदार्थ के आधार पर भुगतान किया जाता है। (ख) जी हाँ। सागर संभाग अंतर्गत दुग्ध मापक यंत्र डिजीटल मशीन एन.डी.डी.बी. द्वारा प्रदाय की जाती है एवं उन्हीं के द्वारा गुणवत्ता जाँच समय-समय पर की जाती है एवं भोपाल संभाग अंतर्गत भोपाल दुग्ध संघ द्वारा रील, श्री कामधेनू, स्टेप्लेस एवं प्राम्प्ट कंपनी के ए.एस.सी.यू. व डी.पी.एम.सी.यू. के उपकरण क्रय कर प्रदाय किये है जिनके माध्यम से दुग्ध फैट एवं एस.एन.एफ. मात्रा की जाँच कर मूल्य निर्धारण किया जाता है। इन्हीं मशीनों का उपयोग ग्रामीण क्षेत्र में दुग्ध समितियों के कलेक्शन सेंटरों पर किया जाता है।
रोड निर्माण कार्य की परमिशन न दिया जाना
[वन]
11. ( क्र. 3973 ) श्री अजब सिंह कुशवाह : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला शिवपुरी के मंगरोनी से रोड निर्माण कार्य की वन विभाग द्वारा परमिशन मिल गई है? यदि मिल गई है तो किस अधिकारी द्वारा परमिशन दी गई इससे वन विभाग की कितनी जमीन प्रभावित हुई है? क्या यह दिशा निर्देश के अनुसार है? यदि हाँ, तो छायाप्रति उपलब्ध करायें। (ख) विभाग की जमीन 1.000 हेक्टेयर के ज्यादा प्रभावित हुई है तो विभाग द्वारा रोड बनाने वाली एजेन्सी व पी.डब्ल्यू.डी. विभाग पर कितना जुर्माना किया गया है जो जुर्माना किया गया वह किस अधिकारी के हाथ जमा हुआ रसीद सहित जानकारी उपलब्ध करायें।
वन
मंत्री ( श्री
कुंवर विजय
शाह ) : (क) जी
हाँ। जिला
शिवपुरी के
मगरोनी से रोड
निर्माण की
अनुमति वन
विभाग द्वारा
कार्यपालन यंत्री, लोक
निर्माण
विभाग, संभाग
शिवपुरी को दी
गई है। जिसमें
0.540
हेक्टेयर
वनक्षेत्र
प्रभावित हुआ
है तथा यह स्वीकृति
नियमों के
अनुसार दी गई है।
स्वीकृति की छायाप्रति
संलग्न
परिशिष्ट
अनुसार है। (ख)
जी नहीं। वन विभाग
द्वारा
एजेन्सी व
पी.डब्ल्यू.डी.
विभाग को
जुर्माना
नहीं किया गया
है। शेष
कार्यवाही का
प्रश्न ही
उपस्थित नहीं
होता है।
परिशिष्ट
- "दो"
सौर ऊर्जा प्लांट की दिशा निर्देशानुसार परमिशन न दिया जाना
[वन]
12. ( क्र. 3974 ) श्री अजब सिंह कुशवाह : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वन मण्डल शिवपुरी के बिनेगा आश्रम के पास वन विभाग की भूमि पर सौर ऊर्जा प्लांट का निर्माण किया गया है? यदि हाँ, तो किस अधिकारी द्वारा सौर ऊर्जा प्लांट निर्माण की परमिशन दी गई। आदेश की प्रति उपलब्ध करायें। (ख) परमिशन दी गई है तो कितने हेक्टेयर की दी गई है तो दिशा निर्देशानुसार वन क्षेत्र से कितनी दूरी है। (ग) क्या जो परमिशन दी गई है वह सौर ऊर्जा प्लांट के लिए दी गई है या किसी अन्य योजना के लिए दी गई है?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) जी नहीं। (ख) एवं (ग) प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
माझी जनजाति को जाति प्रमाण-पत्र जारी करना
[जनजातीय कार्य]
13. ( क्र. 4240 ) श्री कुँवर विक्रम सिंह : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या म.प्र. शासन के म.प्र. की माझी जनजाति के अन्तर्गत कहार, ढीमर, मल्लाह भोई, केवट आदि को अनुसूचित जनजाति के अन्तर्गत मान्य किया है। यदि हाँ, तो तत्संबंधी समस्त आदेश की प्रति देवें? (ख) माझी जाति के अन्तर्गत प्रश्नांश (क) में उल्लेखित जातियों के लोगों में माझी जनजाति के प्रमाण-पत्र प्राप्त किये थे, उनकों केवल 2005 तक ही किस संवैधानिक प्रावधान के तहत मान्य किया? (ग) प्रश्नांश (क) में यदि सरकार ने एक बार उनकों अनुसूचित जनजाति माना है तो 2005 के बाद प्रमाण-पत्र धारकों को अनुसूचित जनजाति से क्यों वंचित किया जा रहा है इसके कारण स्पष्ट कीजिए? (घ) शासन की विरोधाभासी नीतियों से हजारों माझी समाज के बच्चें जिन्होंने विभिन्न स्कूल एवं कालेजों में प्रवेश ले लिया थे, वह कई तरह की मानसिक प्रताड़ना का शिकार हो रहे हैं उनके विरूद्ध जो जाँच चल रही है, ऐसी जाँच सरकार कब तक समाप्त करेगी?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी नहीं (ख) एवं (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) नियमानुसार जाँच की जा रही है। जाँच समाप्त करने का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
माझी जनजाति को जाति प्रमाण-पत्र का प्रदाय
[जनजातीय कार्य]
14. ( क्र. 4241 ) श्री कुँवर विक्रम सिंह : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या म.प्र. में अनुसूचित जनजाति के अन्तर्गत माझी जाति भी अधिसूचित है? (ख) यदि हाँ, तो? माझी जाति के लोग कौन-कौन से जिलों में किस-किस उपजाति, जाति और उपनाम से जाने जाते है? (ग) क्या म.प्र. के पिछड़े वर्ग की सूची के क्रमांक 12 में जो जातियां दर्शायी गई हैं वह माझी जाति से तालमेल रखती है? (घ) यदि हाँ, तो राज्य सरकार माझी जाति जो अनुसूचित जनजाति और पिछड़े वर्ग दोनों में उल्लेखित होने से इनको जाति प्रमाण-पत्र बनाने में राज्य शासन के अधिकारी भ्रमित रहते हैं क्या उनको स्पष्ट निर्देश देने पर शासन स्तर पर कार्यवाही प्रचलन में है। (ड.) यदि हाँ, तो क्या माझी जाति को पिछड़ा वर्ग की सूची के क्रमांक 12 में दर्शित जातियों के समूह को पिछड़ा वर्ग की सूची में विलोपित किया जावेगा। यदि हाँ, तो कब तक और किस प्रक्रिया तथा किस संवैधानिक प्रावधान के तहत?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ। (ख) भारत सरकार द्वारा मध्यप्रदेश राज्य के लिए जारी अनुसूचित जनजाति की सूची में क्रमांक 29 पर माझी (MAJHI) सम्पूर्ण मध्यप्रदेश के लिए अनुसूचित जनजाति अधिसूचित है। इस सूची में माझी के साथ इसकी कोई उपजाति, उपनाम का उल्लेख नहीं है। (ग) जी नहीं (घ) उपरोक्त के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (ड.) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
कृषि उपज मंडी से प्राप्त उपकर की राशि
[सामाजिक न्याय एवं निःशक्तजन कल्याण]
15. ( क्र. 4242 ) श्री कुँवर विक्रम सिंह : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) विधानसभा के उपचुनाव के पूर्व मान. मुख्यमंत्री जी ने कृषि उपज में लगने वाला उपकर (शेष) समाप्त करने की घोषणा की थी। उस आदेश की प्रति उपलब्ध करावें? (ख) क्या कृषि उपज पर लगने वाला उपकर जो निराश्रित निधि में जमा होना था जिससे अनुदान देकर नि:शक्तजन एवं वृद्धजनों के पुर्नवास के कार्यक्रम चलते थे तथा रैन बसेरा संचालित होते थे, वह निराश्रित निधि न होने से बंद हो रहे हैं। (ग) यदि नहीं, तो शासन ने उनके संचालन के लिये कितना-कितना बजट का प्रावधान किया है। यदि हाँ, तो कितने वृद्धाश्रमों को अनुदान देना बाकी है। सूची बतावें। जिन्हें अप्राप्त हैं उन्हें कब तक अनुदान दे दिया जावेगा?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी नहीं। मंडी फीस को कम किया गया है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) जी नहीं। (ग) म.प्र. शासन, सामाजिक न्याय एवं नि:शक्तजन कल्याण विभाग द्वारा जिला कलेक्टर को निराश्रित निधि में संग्रहित ब्याज की राशि से रुपये 2.00 लाख तक व्यय करने के अधिकार प्रदत्त है। प्रदेश में जिला स्तर पर वृद्धजन हेतु संचालित वृद्धाश्रमों से आवश्यकतानुसार अनुदान प्रस्ताव प्राप्त होने पर ई.पी.ओ. के माध्यम से अनुदान उपलब्ध कराया जाता है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। यह एक सतत् प्रक्रिया है अनुदान प्रस्ताव प्राप्त होने पर तत्काल उपलब्ध कराया जाता है।
सिम्स हॉस्पिटल की जानकारी का प्रदाय
[चिकित्सा शिक्षा]
16. ( क्र. 4354 ) श्री सोहनलाल बाल्मीक : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) छिंदवाड़ा में जो सिम्स हॉस्पिटल का निर्माण कार्य किया जा रहा है, उस निर्माण कार्य की लागत राशि क्या है? वर्तमान में कितनी-कितनी लागत के कौन-कौन से कार्य पूर्ण कराये जा चुके है? कौन-कौन से कार्य अपूर्ण हैं? भौतिक स्थिति बतायें। वर्तमान में सिम्स हॉस्पिटल का निर्माण कार्य बन्द होने का क्या कारण है? (ख) सिम्स हॉस्पिटल छिंदवाड़ा की स्वीकृति के उपरांत सम्पूर्ण सिम्स हॉस्पिटल का निर्माण एवं उपकरणों के क्रय हेतु कितना बजट शासन द्वारा प्रदान किया गया था? जो बजट पिछली सरकार के द्वारा निर्धारित किया गया था क्या उसी बजट के अनुसार सिम्स हॉस्पिटल छिंदवाड़ा का निर्माण कार्य कराया जा रहा है या नहीं? (ग) सिम्स हॉस्पिटल छिंदवाड़ा के विभिन्न निर्माण कार्यों व उपकरणों के क्रय व अन्य कार्य सुविधा हेतु जो बजट पिछली सरकार के द्वारा निर्धारित किया गया था, क्या उस बजट राशि में से कटौती कर, शासन/विभाग द्वारा अन्य कार्य हेतु राशि स्थानांतरित की गई है? (घ) सिम्स हॉस्पिटल छिंदवाड़ा को प्रारंभ करने की सम्पूर्ण औपचारिकताओं को कब तक शासन/विभाग द्वारा पूर्ण कर, अस्पताल को प्रारंभ कर दिया जायेगा? अस्पताल में मरीजों के लिए कौन-कौन सी सुविधायें उपलब्ध रहेगी?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) छिन्दवाड़ा इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साईंस हॉस्पिटल भवन के निर्माण कार्य की प्रशासकीय स्वीकृति दिनांक 13/09/2019 द्वारा राशि रूपये 1455.33 करोड़ की पुनरीक्षित प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की गई है। कार्य प्रगति पर है, जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) सिम्स हॉस्पिटल छिंदवाड़ा की स्वीकृति उपरांत राशि रूपये 6478.22 लाख बजट प्रदाय किया गया। जी हाँ। (ग) जी नहीं। (घ) निर्माण कार्य प्रगति पर है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। सुविधाओं की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है।
शिक्षक सवंर्ग में आये शिक्षकों को समयमान-वेतनमान का भुगतान
[स्कूल शिक्षा]
17. ( क्र. 4478 ) श्री सुखदेव पांसे : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) स्कूल शिक्षा विभाग, द्वारा मध्यप्रदेश शासन के आदेश क्रमांक एफ/1-14/2019/20-1 भोपाल, दिनांक 27/07/2019 के द्वारा अध्यापक संवर्ग हेतु सेवा नियम जारी किये गये थे? (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में सेवा शर्तों के नियम 2 के कंडिका क्रमांक 2.15 व नियम 3 के कंडिका क्रमांक 3.4 में समयमान देने का उल्लेख किया गया था यदि हाँ, तो 10 व 20 वर्ष की सेवा पूर्ण कर चुके कितने-कितने उच्च माध्यमिक शिक्षकों को समयमान वेतनमान देने के आदेश प्रसारित हुए हैं? संख्या बताएं? (ग) प्रश्नांश (ख) के संबंध में यदि समयमान वेतनमान देने के आदेश जारी कर दिये गये हैं तो सेवा शर्तें जारी होने के इतने समय बाद भी समयमान वेतनमान देने के आदेश क्यों प्रसारित नहीं हुए हैं? (घ) स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा समयमान और वेतनमान न देने के कारण अंशदायी पेंशन में कटौत्रा न होने से होने वाले आर्थिक नुकसान की भरपाई कब तक और कैसे कर दी जायेगी तथा इस संबध में कार्यवाही प्रचलन में हैं तो स्थिति से अवगत करावें।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी नहीं, अपितु प्रश्नांकित परिपत्र द्वारा नवीन शैक्षणिक संवर्ग में नियुक्ति लोक सेवकों हेतु सेवा शर्तें जारी की गई है। (ख) प्रश्नांकित परिपत्र की कण्डिका-2.15 में अध्यापक संवर्ग में पूर्व में की गई सेवा अवधि का लाभ पदोन्नति/क्रमोन्नति/समयमान हेतु सेवा की गणना में लिये जाने के संबंध में निर्देश है तथा परिपत्र की कण्डिका 3.4 में पदोन्नति/क्रमोन्नति/समयमान का लाभ प्राप्त करने के लिए भर्ती नियम तथा संगत नियम निर्देशों में उल्लेखित शर्तों तथा मापदण्डों की पूर्ति किये जाने के निर्देश है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) एवं (घ) उत्तरांश (ख) के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
वृद्धा पेंशन दिये जाने के नियम
[सामाजिक न्याय एवं निःशक्तजन कल्याण]
18. ( क्र. 4488 ) श्री कमलेश्वर पटेल : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सीधी एवं सिंगरौली जिलों में 01 जनवरी, 2021 की स्थिति में मतदाता सूची अनुसार कितने व्यक्ति 60 वर्ष के हो गये है जो कि विभाग की पात्रता मापदण्ड के अनुसार पात्र है? पंचायतवार संख्यात्मक जानकारी देवें? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में उक्त व्यक्तियों को कब तक पेंशन का लाभ दिया जायेगा? समय-सीमा बतायें? विभाग को ज्ञात है कि माह जनवरी, 2021 की मतदाता सूची में जो व्यक्ति पूर्व में 59 वर्ष के थे अब 60 वर्ष के हो गये हैं तो अभियान चलाया जाकर पेंशन उसी माह में स्वीकृत क्यों नहीं कर दी जाती है? विभाग द्वारा इस हेतु यदि कोई निर्देश/पत्र जारी किया गया है तो प्रति उलपब्ध करावें? यदि निर्देश/पत्र जारी नहीं किया गया है तो कब तक जारी कर दिया जावेगा? (ग) सामाजिक सुरक्षा वृद्धा पेंशन (Non BPL) दिये जाने के क्या नियम हैं? आवेदन फार्म में किस-किस अधिकारी/कर्मचारी से सत्यापन कराया जाता है? विभाग द्वारा सीधी एवं सिंगरौली जिले के सभी विकासखण्डों में उक्त योजना के तहत कितनी पेंशन स्वीकृत की गई है? विगत 3 वर्षों की संख्यात्मक जानकारी उपलब्ध कराई जाये? (घ) प्रश्नांश (ग) के संदर्भ में क्या उक्त योजना के तहत विभाग द्वारा अन्य योजनाओं की तुलना में कम पेंशन स्वीकृत की जाती है? यदि हाँ, तो इसका कारण है?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) सीधी एवं सिंगरौली जिले में 01 जनवरी 2021 की स्थिति में मतदाता सूची अनुसार 60 वर्ष की आयु पूर्ण करने वाले व्यक्तियों को पात्रता के मापदण्ड अनुसार पंचायतवार पात्र हितग्राहियों की संख्यात्मक जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में उक्त व्यक्तियों को पात्रता अनुसार पेंशन का लाभ समय-सीमा में प्रदाय किया जा रहा है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। माह जनवरी 2021 की मतदाता सूची में जो व्यक्ति पूर्व में 59 वर्ष के थे अब 60 वर्ष के हो गये है उन्हें प्रथम दृष्टया पात्रता की सूची पेंशन पोर्टल से प्राप्त कर नियमानुसार पेंशन स्वीकृत की जा रही है। निर्देश की छायाप्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) सामाजिक सुरक्षा पेंशन योजना के अंतर्गत निराश्रित वृद्ध जिनकी आयु 60 वर्ष से अधिक हो को वृद्धावस्था पेंशन दिये जाने का प्रावधान है। पेंशन प्राप्त करने के लिये सत्यापन की कार्यवाही ग्रामीण क्षेत्रों के लिये ग्राम पंचायत सचिव एवं नगरीय क्षेत्र के लिये वार्ड प्रभारी के द्वारा सत्यापन कराया जाता है। सीधी एवं सिंगरौली जिला में सामाजिक सुरक्षा वृद्धा पेंशन योजना के तहत लाभान्वित हितग्राहियों विगत तीन वर्षों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार। (घ) जी नहीं। नियमानुसार पेंशन स्वीकृत किये जाने का प्रावधान है।
शाला उन्नयन के नियम, अधिनियम एवं मापदण्ड
[स्कूल शिक्षा]
19. ( क्र. 4489 ) श्री कमलेश्वर पटेल : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शाला उन्नयन के क्या नियम, अधिनियम, मापदण्ड शासन ने जारी किये है जो कि वर्तमान में प्रचलित है? प्रतियां उपलब्ध करायें। सिहावल विधान सभा क्षेत्र के कौन-कौन से शालाओं को उन्नयन किये जाने हेतु चिन्हित किया गया हैं? कितने प्रस्ताव किन-किन शालाओं के शासन स्तर पर लंबित है? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में शासकीय हाई स्कूल पोड़ी, शासकीय हाई स्कूल टीकर, शासकीय हाई स्कूल कुनझुन कला, शासकीय हाई स्कूल फुलवारी, शासकीय हाई स्कूल गहिरा, शासकीय हाई स्कूल पैगमा, शासकीय हाई स्कूल कन्या सिहावल, शासकीय हाई स्कूल गोड़ाही, शासकीय हाई स्कूल पहाड़ी, शासकीय हाई स्कूल कोरौली कला, शासकीय हाई स्कूल हटवा एवं शासकीय हाई स्कूल कोदोरा व अन्य हाई स्कूलों का उन्नयन किये जाने की आवश्यकता है? उक्त शालाओं को हाई स्कूल से हायर सेकेण्ड्री स्कूल में उन्नयन कब तक कर दिया जावेगा? (ग) माध्यमिक शाला ददरीकला, माध्यमिक शाला जतखनिहा, माध्यमिक शाला घोपारी व अन्य माध्यमिक शालाओं को हाई स्कूल में उन्नयन कब तक कर दिया जावेगा? सिहावल विधान सभा क्षेत्र में शासकीय विद्यालयों में विभागीय अधिकारियों द्वारा कब-कब निरीक्षण किया गया? मरम्मत व रख-रखाव के कार्य कौन-कौन सी विद्यालयों में कराये गये है? कौन-कौन से विद्यालय मरम्मत योग्य है? किन-किन विद्यालयों में बाउण्ड्रीवॉल नहीं है? किन-किन विद्यालयों में पेयजल हेतु हैण्डपंप/बोरवेल व पाइप लाइन टंकी की व्यवस्था नहीं है? किन-किन विद्यालयों में बच्चों की बैठक व्यवस्था हेतु कुर्सी-टेबिल नहीं है? कब तक निरीक्षण कराया जाकर सभी व्यवस्थाएं दुरूस्त कराई जावेगी? समय-सीमा बतायें। (घ) माडल स्कूल सिहावल स्थित बमुरी में बाउण्ड्रीवॉल निर्माण हेतु कब तक राशि आवंटित की जाकर कार्य कराया जावेगा?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। सिहावल विधानसभा क्षेत्र में उन्नयन हेतु कोई भी शाला चिन्हित नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) निर्धारित मापदण्ड अनुसार न होने से चिन्हित नहीं हुए है। सर्वसुविधा सम्पन्न परिवहन एवं अन्य संसाधनों से युक्त सी.एम. राइज शालाओं की स्थापना किये जाने संबंधी कार्यवाही वर्तमान में प्रस्तावित है। उक्त परिप्रेक्ष्य में नवीन नीति अनुसार निर्णय लिया जा सकेगा। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ग) कक्षा 1 से 8 तक की शालाएं सत्र 2021 में कोविड-19 के संक्रमण के कारण बंद रहने से निरीक्षण नहीं किया गया। हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों के निरीक्षण संबंधी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। विधानसभा क्षेत्र के शासकीय उ.मा.वि. वहरी में रू. 25000/- से लघु मरम्मत कार्य कराये गये है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार है। बाउण्ड्रीवॉल निर्माण तथा फर्नीचर प्रदाय बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। जिलों से मरम्मत प्रस्ताव के आधार पर राशि जारी की जाती है। हैण्डपंप/बोरवेल व्यवस्था नवीन भवन में भवन के साथ की जाती है। शेष में ग्रामीण यांत्रिकी विभाग द्वारा की जाती है। प्राथमिक/माध्यमिक शाला के प्रस्ताव कार्ययोजना वर्ष 2021-22 में उक्तानुसार सभी व्यवस्थाएं दुरूस्त कराए जाने हेतु प्रस्ताव भारत सरकार को प्रेषित किए जा रहे है। भारत सरकार से स्वीकृति एवं बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (घ) बाउण्ड्रीवॉल निर्माण बजट की उपलब्धता पर निर्भर करता है। निश्चित समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठीत कमेटी
[जनजातीय कार्य]
20. ( क्र. 4501 ) श्री धरमू सिंग सिरसाम : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) जनवरी 2008 से लागू वन अधिकार कानून 2006 के तहत मुख्य सचिव की अध्यक्षता में किस-किस दिनांक को बैठक का आयोजन किया गया। (ख) मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित कमेटी ने लघु वनोपज से संबंधित वन अधिकार कानून 2006, पेसा कानून 1996, संविधान की 11वीं अनुसूची के प्रावधानों से संबंधित किस दिनांक की बैठक में क्या-क्या निर्णय लिया, किस दिनांक को आदेश जारी किए निर्णय एवं आदेश की प्रति सहित बतावें। (ग) मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित कमेटी लघु वनोपज से संबंधित विषयों पर कब तक निर्णय लेकर आदेश जारी किए।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) अनुसूचित जनजाति और अन्य परम्परागत वन निवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम 2006 के तहत मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित राज्य स्तरीय निगरानी समिति की बैठकों के दिनांकों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र -एक अनुसार है। (ख) मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित राज्य स्तरीय निगरानी समिति की बैठक दिनांक 6 फरवरी 2014 में लघु वनोपज के संबंध में निर्णय लिया गया। आयुक्त आदिवासी विकास मध्यप्रदेश भोपाल के पत्र क्रमांक/वन अधि./503/14/5733 दिनांक 21.02.2014 द्वारा वन विभाग को कार्यवाही विवरण की प्रति पालन प्रतिवेदन हेतु प्रेषित की गई। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- दो अनुसार है। पेसा कानून 1996 एवं संविधान की 11वीं अनुसूची के संबंध में कोई निर्णय न लिये जाने से शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
फर्जी जाति प्रमाण पत्रों की जांच
[जनजातीय कार्य]
21. ( क्र. 4655 ) श्री जुगुल किशोर बागरी : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) शासन द्वारा फर्जी प्रमाण पत्रों के आधार पर शासकीय सेवा में नियुक्त प्राप्त कर अथवा शासकीय सेवा में नियुक्ति उपरांत फर्जी प्रमाण पत्रों का उपयोग करने के संबंध क्या दण्ड का प्रावधान किया गया है? उपरोक्त के संबंध में समय-समय पर जारी शासनादेशों की प्रतियां देवें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार सहकारिता विभाग के किन-किन लोकसेवकों के विरूद्ध फर्जी प्रमाण पत्रों से संबंधित जाँच किन-किन स्तरों पर प्रक्रियाधीन है? (ग) क्या जी.पी. सोनकुसरे तत्कालीन उपायुक्त सतना जो कि अन्य पिछड़ा वर्ग के हैं के द्वारा अनुसूचित जनजाति का फर्जी प्रमाण पत्र तैयार कराकर उसका लाभ लिया गया, की शिकायत पत्र क्रमांक 430 दिनांक 12/9/2020 द्वारा की गई थी में की गई कार्यवाही की पूर्ण जानकारी देवें। क्या संबंधित की जाँच वर्तमान में उच्च स्तरीय छानबीन समिति स्तर पर लंबित है? यदि पूर्ण हो गई है तो बतावें कि अभी तक शासनादेशों के अनुक्रम में कार्यवाही न किये जाने का क्या कारण है? (घ) प्रश्नांश (क), (ख), (ग) के परिप्रेक्ष्य में फर्जी प्रमाण पत्र के आधार पर लाभ प्राप्त करने पर दोषी के विरूद्ध कब तक एफ.आई.आर. दर्ज कराते हुये सेवा से बरखास्त करने की कार्यवाही की जावेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ। नियुक्तिकर्ता कार्यालय द्वारा ही संबंधित के विरूद्ध कार्यवाही की जाती है। शासनादेशों की प्रतियां पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) 1. श्री अवधेश प्रसाद केवट आत्मज श्री धनीराम केवट-वरिष्ठ सहकारिता निरीक्षक-पुलिस अधीक्षक से जाँच प्रतिवेदन अपेक्षित। 2. राजाराम भट्ट, पिता श्री गोविंद भट्ट-सहकारिता विस्तार अधिकारी, छानबीन समिति के समक्ष। 3. श्री जी.पी.सोनकुसरे पिता श्री डोमादास सोनकुसरे-उपायुक्त, सहकारिता-छानबीन समिति के समक्ष। (ग) पत्र क्र. 429 दिनांक 12/09/2020 द्वारा शिकायत प्राप्त। पुलिस अधीक्षक से जाँच प्रतिवेदन प्राप्त की गई, अनावेदक से प्रतिवाद अप्राप्त। छानबीन समिति के समक्ष। (घ) छानबीन समिति के निर्णय उपरांत नियुक्तिकर्ता विभाग द्वारा कार्यवाही की जायेगी। समय-सीमा बताये जाना संभव नहीं है।
शासकीय शालाओं में विद्युत व्यवस्था
[स्कूल शिक्षा]
22. ( क्र. 4812 ) श्री मनोज चावला : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश की सभी शासकीय शालाओं में विद्युत व्यवस्था हेतु राशि स्वीकृत की जाती है? यदि हाँ, तो बताएं कि क्या सभी विद्यालयों में विद्युत व्यवस्था करने हेतु इस संबंध में शासन से कोई आदेश जारी हुआ है? (ख) रतलाम जिले में कुल कितने प्राथमिक, माध्यमिक, हाईस्कूल और हायर सेकेण्डरी स्कूल है जिनमें विद्युत व्यवस्था हेतु कनेक्शन है और कितने में नहीं तहसीलवार स्कूल की संख्या बताएं। (ग) प्रश्नांश (ख) अंतर्गत शालाओं में प्रश्न दिनांक तक विद्युत बिलों का कुल कितना विद्युत बिल बकाया है तहसीलवार सभी शालाओं की सूची उपलब्ध कराएं। क्या शालाओं में विद्युत बिलों का भुगतान करने हेतु पृथक से कोई राशि जारी की गई हैं या नहीं यदि नहीं, तो शालाओं में विद्युत बिलों का भुगतान करने की क्या व्यवस्था है? (घ) क्या रतलाम जिले अंतर्गत उल्लेखित शालाओं में विद्युत कनेक्शन नहीं होने पर भी विद्युत के बिल दिए जा रहे हैं ऐसी शालाओं की सूची उपलब्ध कराएं।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) प्रदेश के शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं में विद्युत व्यवस्था हेतु स्वीकृति बजट की उपलब्धता अनुसार की जाती है। आदेश की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों में जिले के प्रस्ताव पर राशि प्रदाय की जाती है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है। हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों में लंबित विद्युत बिलों के भुगतान हेतु आहरण संवितरण अधिकारी को ग्लोबल बजट उपलब्ध कराया जाता है। शालाओं में विद्युत बिलों का भुगतान विद्यालय द्वारा लोकल एवं एस.एम.डी.सी. मद से भी किया जाता है। प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं में विद्युत बिलों का भुगतान करने हेतु पृथक से कोई राशि जारी नहीं की गई हैं, अपितु शाला प्रबंधन समिति को जारी की जाने वाली एकीकृत शाला निधि से विद्युत बिलों का भुगतान करने के निर्देश है (घ) हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों के संबंध में ऐसी जानकारी संज्ञान में नहीं आई है। प्राथमिक/माध्यमिक विद्यालयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-द अनुसार है।
जबलपुर जिले में स्वास्थ्य सुविधायें बढ़ाना
[चिकित्सा शिक्षा]
23. ( क्र. 4972 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मेडिकल कॉलेज जबलपुर में सेंटर फॉर एक्सीलेंस इन न्यूरो सर्जरी एवं पल्मोनरी मेडिसिन के अंतर्गत सुविधायें शुरू की गई हैं? (ख) यदि हाँ, तो क्या उपकरणों की व्यवस्था कर ली गई है? यदि नहीं, तो क्यों? (ग) प्रश्नांश (क) के अंतर्गत कब तक ये सुविधायें उपलब्ध होगी?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जी हाँ। आंशिक रूप से सुविधाएं शुरू की गई संलग्न परिशिष्ट अनुसार। (ख) जी हाँ। आंशिक रूप उपकरणों की व्यवस्था कर ली गई है। शेष कार्यवाही प्रचलन में है। (ग) भवन निर्माण कार्य पूर्ण होने पर समस्त सुविधाएं पूर्ण रूपेण उपलब्ध होगी।
नियम विरूद्ध राशि का भुगतान
[चिकित्सा शिक्षा]
24. ( क्र. 4975 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विषयांकित प्रकरण में दवा क्रय नीति वर्ष 2009 के नियमों के विरूद्ध जाकर राशि 1.25 करोड़ आपूर्तिकर्ता को भुगतान कर शासन को क्षति पहुँचाई गई है? (ख) क्या महालेखाकार म.प्र. ग्वालियर ने पत्र दिनांक 23.5.2016 के द्वारा आपत्ति ली थी? (ग) क्या जाँच उपरांत आपत्ति सही पाई गई? (घ) यदि हाँ, तो क्या राशि की वसूली कर कार्यवाही की जावेंगी?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जी नहीं। (ख) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी नहीं। कार्यवाही प्रचलन में है। (घ) शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जबलपुर स्टेट एलाईड हेल्थ संस्थान की स्थापना
[चिकित्सा शिक्षा]
25. ( क्र. 4976 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या पैरामेडिकल पाठ्यक्रमों हेतु केन्द्र से स्टेट एलाईड हेल्थ संस्थान की स्थापना हेतु राशि प्राप्त हुई हैं? (ख) यदि हाँ, तो कितनी राशि कब प्राप्त हुई? (ग) प्रश्नांश (ख) के अंतर्गत क्या प्राप्त राशि किसी अन्य मद में व्यय कर दी गई है? (घ) यदि नहीं, तो संस्थान का कार्य कब प्रारंभ किया जावेगा?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जी हाँ। (ख) भारत शासन के पत्र Z-28020/03/ 2013-AHS (pt) New Delhi dated 17/09/2018 द्वारा राज्य शासन को प्रथम किश्त के रूप में राशि रू. 411 करोड़ की राशि स्वीकृत है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ग) जी नहीं। (घ) कार्य की प्रशासकीय स्वीकृति हेतु कार्यवाही प्रचलन में है।
डेयरी संवर्ग के पदों से सांख्येत्तर शब्द विलोपित करना
[पशुपालन एवं डेयरी]
26. ( क्र. 5030 ) श्री कुँवरजी कोठार : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन द्वारा डेयरी संवर्ग के शासकीय सेवकों के पदों को साँख्येत्तर घोषित किया गया है? यदि हाँ, तो क्यों? क्या इसमें कर्मचारी/अधिकारी संगठनों से चर्चा की गई थी? यदि हाँ, तो कब-कब किन-किन संगठनों से क्या-क्या चर्चा की गई? क्या कर्मचारी/अधिकारी संगठनों द्वारा साँख्येत्तर घोषित करने हेतु स्वीकृति दी गई थी? यदि स्वीकृति नहीं दी गई थी, तो फिर किस आधार पर डेयरी संवर्ग के शासकीय सेवकों के पदों को सांख्येत्तर घोषित किया गया है? (ख) क्या शासन ने साँख्येत्तर घोषित पदों पर कार्यरत शासकीय सेवकों को पदोन्नति से वंचित रखा है? यदि हाँ, तो क्या इन डेयरी संवर्ग के शासकीय सेवकों के साथ अन्याय नहीं है? यदि है तो क्या शासन इस सांख्येत्तर शब्द को विलोपित कर पुरानी व्यवस्था बहाल करेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो कारण सहित स्पष्ट करे। (ग) क्या शासन इस सांख्येत्तर शब्द को विलोपित कर खाली उच्च पदों पर (पदनाम) प्रभार दिये जाने की प्रक्रिया में डेयरी संवर्ग के शासकीय सेवकों को भी शामिल किया जावेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी हाँ। डेयरी विकास विभाग का वर्ष 10.04.2000 में पशुपालन विभाग में संविलियन कर डेयरी विकास विभाग के पदों को सांख्येत्तर घोषित किया गया। कर्मचारी/अधिकारी संगठनों से चर्चा की गई अथवा नहीं, की जानकारी उपलब्ध नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं। (ख) पद सांख्येत्तर घोषित होने से कर्मचारी/अधिकारी की सेवा निवृत्त/मृत्यु/त्याग पत्र उपरांत वह पद स्वत: समाप्त हो जाता है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) वर्तमान में विचाराधीन नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं।
वन विभाग के निर्माण कार्यों की जानकारी
[वन]
27. ( क्र. 5095 ) श्री विजयराघवेन्द्र सिंह : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन द्वारा वन विभाग के माध्यम से भवनों एवं मार्गों का निर्माण करवाये जाने के निर्देश है। यदि हाँ, तो, निर्देश की प्रति उपलब्ध करावें। (ख) वर्ष 2016 से प्रश्न दिनांक तक कटनी एवं सतना द्वारा कितने भवनों का निर्माण किस-किस स्थान पर कितनी-कितनी लागत से किया गया है भवन पूर्ण है अथवा अपूर्ण जानकारी देवें। (ग) वनमण्डल कटनी एवं सतना के अन्तर्गत दिनांक 01 अप्रैल 2016 से प्रश्न दिनांक तक कितने किलोमीटर के वन मार्ग बनाये गये है। दिनांक व राशि सहित पृथक-पृथक विवरण दें। (घ) क्या दिनांक 01 अप्रैल 2016 से प्रश्न दिनांक तक उक्त मार्गों का निर्माण कार्य पूर्ण हो चुका है अथवा अधूरे हैं पूर्ण जानकारी देवें। यदि उक्त अवधि में उक्त निर्माण कार्यों में किसी अनियमितता की शिकायत हो तो शिकायतवार कार्यवाहीवार विवरण दें।
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) वन विभाग के माध्यम से भवनों एवं मार्गों का निर्माण कराये जाने के संबंध में वित्तीय शक्ति पुस्तिका 1995 में दिये गये अधिकारों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 में है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 में है। (ग) एवं (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 में है।
शिक्षा विभाग में संलग्नीकरण
[स्कूल शिक्षा]
28. ( क्र. 5096 ) श्री विजयराघवेन्द्र सिंह : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शिक्षा विभाग में संलग्नीकरण पर पूर्णत: रोक लगी है? यदि हाँ, तो कटनी एवं सतना जिले में किस-किस को संलग्न किया गया है? (ख) क्या शासन एवं आयुक्त लोक शिक्षण द्वारा संलग्नीकरण एवं जिसका वेतन जिस स्थान से निकल रहा है उस स्थान पर कार्य करने हेतु आदेशित किया गया है? (ग) प्रश्नांश (ख) में यदि किया गया है तो व्यवसायिक शिक्षा के व्याख्याता किस आदेश के तहत विभिन्न कार्यालय में संलग्न है? (घ) यदि अभी भी जबलपुर एवं रीवा संभाग में व्याख्याता संलग्न है तो क्या दोषी अधिकारी पर क्या कार्यवाही हुई? यदि नहीं, तो कब तक की जावेगी और अन्य विभाग में जो शिक्षक एवं अन्य प्रतिनियुक्ति पर है उन्हें कब तक विभाग में वापस किया जावेगा?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। डाईट सतना से श्री आनंद रावत, भृत्य को कार्यालय अनुविभागीय अधिकारी रघुराज नगर जिला सतना में संलग्न किया गया है। शेष संलग्नीकरण संबंधी जानकारी एकत्रित की जा रही है। (ख) जी हाँ। (ग) संचालनालय के आदेश दिनांक 17.11.2016 के तहत। (घ) जी हाँ, पुरानी व्यावसायिक शिक्षा के ऐसे ट्रेड जो वर्तमान में कौशल अनुरूप नहीं है, बंद किये गये है। प्रचलित ट्रेड अनुसार शालाओं में विद्यार्थी नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
क्रिकेट टीम छतरपुर को स्पोर्ट व्हील चेयर का प्रदाय
[सामाजिक न्याय एवं निःशक्तजन कल्याण]
29. ( क्र. 5233 ) श्री आलोक चतुर्वेदी : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या छतरपुर जिले में दिव्यांग खिलाड़ियों की व्हील चेयर क्रिकेट टीम गठित है। (ख) प्रश्नांश "क" हाँ है तो इसके कितने खिलाड़ियों ने राष्टीय एवं अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रदर्शन किया है। (ग) प्रश्नांश "क" के अनुक्रम में क्या उक्त 13 सदस्यी टीम ने स्पोर्ट व्हील चेयर की मांग खेल और युवा कल्याण अधिकारी छतरपुर से की थी। (घ) प्रश्नांश "ग" के अनुक्रम में क्या राष्ट्रीय एवं अंतराष्ट्रीय स्तर के खिलाड़ियों वाली दिव्यांगजनों की टीम की उक्त मांग को शासन स्वीकार कर स्पोर्ट व्हील चेयर प्रदाय करेगी ताकि उक्त टीम प्रेरणा का स्त्रोत बन सके।
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी हाँ। (ख) जिला छतरपुर से निम्नलिखित 06 खिलाड़ियों ने राष्ट्रीय स्तर पर प्रदर्शन किया गया है। 1. श्री मैयादीन अहिरवार 2. श्री रिजवान अहमद 3. श्री बसंत अहिरवार 4. श्री उमेश मोर्य 5. श्री राममिलन कुशवाहा 6. श्री ओमप्रकाश अहिरवार एवं जिला छतरपुर से निम्नलिखित 02 खिलाड़ियों ने अन्तराष्ट्रीय स्तर पर प्रदर्शन किया गया है। 1. श्री मैयादीन अहिरवार 2. श्री रिजवान अहमद। (ग) जी हाँ। (घ) खेल और युवा कल्याण विभाग के खिलाड़ियों को प्रोत्साहन नियम-2019 में ओलम्पिक, एशियन गेम्स, कॉमनवेल्थ गेम्स एवं राष्ट्रीय खेल में खेले जाने वाले खेलों के खिलाड़ियों को राष्ट्रीय एवं अन्तराष्ट्रीय स्तर पर पदक अर्जित करने पर प्रोत्साहन व पुरस्कार प्रदाय किये जाने का प्रावधान है। व्हील चेयर स्पोर्ट्स ओलम्पिक, एशियन गेम्स, कॉमनवेल्थ गेम्स एवं राष्ट्रीय खेल में नहीं खेला जाता है, फलस्परूप स्पोर्ट्स व्हील चेयर प्रदान नहीं की गई।
अंशदान की राशि संबंधितों के खाते में जमा किया जाना
[स्कूल शिक्षा]
30. ( क्र. 5386 ) श्री प्रागीलाल जाटव : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शिवपुरी जिले के करैरा विधानसभा जनपद शिक्षा केन्द्र करैरा एवं नरवर में वर्ष 2011 से 2016 तक पदस्थ रहे सभी वी.ए.सी/सीएसी (अध्यापक संवर्ग) का एन.पी.एस. कटौत्रा हुआ या नहीं। (ख) यदि हाँ, तो इन पाँच वर्षों में किस अवधि का अंशदान उनके प्रान खातों में जमा किया गया यदि कुछ माह का शेष रहा तो आज दिनांक तक उन पर क्या कार्यवाही की गयी। (ग) यदि शेष माह का अंशदान उनके खातों में जमा नहीं हुआ तो कब तक शेष राशि ब्याज सहित उनके प्रान खातों में जमा करा दी जावेगी।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) बी.ए.सी./सी.ए.सी (अध्यापक संवर्ग) का एजुकेशन पोर्टल के माध्यम से विकासखंड श्रोत समन्वयक द्वारा वेतन देयक जनरेट किया जाता है तत्पश्चात इसके आधार पर एन.पी.एस कटौत्रा राज्य द्वारा जमा किया जाता है। (ख) किसी माह का शेष रहा एन.पी.एस के संबंध में ऐसे अध्यापकों की सूची एवं ऐसे अध्यापक संवर्ग के अंशदान की राशि राज्य शिक्षा केन्द्र द्वारा जिले से चाही गयी थी जिसके माध्यम से जिले से चेक कार्यालय में प्राप्त होने के उपरांत एन.पी.एस. अंशदान जमा किया जा चुका है। (ग) अंशदान की राशि जमा कराने की कार्यवाही की जा चुकी है।
सर्व शिक्षा अभियान अंतर्गत स्वीकृत निर्माण कार्य
[स्कूल शिक्षा]
31. ( क्र. 5395 ) श्री कुणाल चौधरी : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत शाजापुर जिले में कितने निर्माण कार्य 2014-15 से प्रश्न दिनांक तक स्वीकृत किये गये हैं? उनमें से कितने पूर्ण अपूर्ण अप्रारंभ है? जिलेवार बतायें कितने कार्यों में एजेन्सी पर कितनी राशि वसूली के लिये निकाली गई है? (ख) सर्व शिक्षा अभियान में भारत सरकार से मध्यप्रदेश को वर्ष 2014-15 से प्रश्न दिनांक तक कितनी राशि किस-किस मद से प्राप्त हुई है? राज्य शासन ने उपरोक्त वर्षों में कितनी राशि की मांग भारत सरकार से की थी? वर्षवार जानकारी बतावें? (ग) क्या भारत सरकार ने मध्यप्रदेश का मांग के अनुपात में कम राशि उपलब्ध कराई है? यदि हाँ, तो उपरोक्तानुसार वर्षवार आंकड़े दिये जायें? (घ) इस वित्तीय वर्ष एवं आगामी वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिये राज्य शासन की क्या कार्य योजना है? जिलेवार बतावें?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। (ग) जी हाँ, मांग केन्द्रांश से, पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार केन्द्रांश राशि की उपलब्धता में कमी रही है। वर्षवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है। (घ) वित्तीय वर्ष 2020-21 की स्वीकृत कार्य योजना की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-द अनुसार है। आगामी वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिये शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार से दिशा-निर्देश प्राप्त होते ही तद्नुसार कार्यवाही की जाएगी। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
स्कूल शिक्षकों के रिक्त पद
[स्कूल शिक्षा]
32. ( क्र. 5531 ) श्री विनय सक्सेना : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जबलपुर जिले के स्कूलों में नियमित शिक्षकों के कितने-कितने पद रिक्त हैं? संख्यात्मक जानकारी उपलब्ध करावें। (ख) म.प्र. में शासकीय स्कूलों में शिक्षकों की नियुक्ति के लिए उच्च माध्यमिक शिक्षक एवं माध्यमिक शिक्षक भर्ती परीक्षा अंतिम बार कब आयोजित हुई थी? (ग) उक्त परीक्षा में पदवार दोनों ही वर्ग में सफल उम्मीदवार की संख्या कितनी-कितनी है क्या सफल प्रतिभागियों को नियुक्ति मिल चुकी है यदि नहीं, तो क्यों? (घ) क्या चयन प्रक्रिया को लोक शिक्षण संचालनालय ने रोका हुआ है? क्या शासन स्तर पर इसे रोकने के लिए लोक शिक्षण संचालनालय को निर्देश मिला था या फिर विभागीय स्तर पर यह निर्णय हुआ है? (ङ) उक्त सफल प्रतिभागियों की नियुक्ति की प्रक्रिया को कब तक पूर्ण किया जाएगा?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) उच्च माध्यमिक शिक्षक एवं माध्यमिक शिक्षक की अंतिम पात्रता परीक्षा क्रमश: दिनांक 01.02.2019 से दिनांक 11.02.2019 एवं दिनांक 16.02.2019 से दिनांक 11.03.2019 तक आयोजित की गई। (ग) उच्च माध्यमिक शिक्षक एवं माध्यमिक शिक्षक पद की पात्रता परीक्षा 2018 में सफल उम्मीदवारों की संख्या क्रमश: 44040 एवं 216240 है। जी नहीं। कोरोना महामारी के कारण चयनित अभ्यर्थियों के दस्तावेज सत्यापन की प्रक्रिया को दिनांक 04.07.2020 को स्थगित की गई थी। (घ) जी नहीं। लोक शिक्षण संचालनालय द्वारा कोरोना महामारी की स्थिति को अवगत कराते हुए दस्तावेज सत्यापन की प्रक्रिया को जारी रखने या स्थगित रखने संबंधी मार्गदर्शन चाहा गया था, जिस पर शासन द्वारा दस्तावेज सत्यापन की प्रक्रिया को स्थगित किए जाने का आदेश दिया गया था। (ड.) दस्तावेज सत्यापन की प्रक्रिया पुनः प्रारंभ की जा रही है। वर्तमान में माननीय उच्च न्यायालय द्वारा नियुक्ति आदेश जारी करने पर स्थगन है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
अल्पसंख्यक आयोग में दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों की नियुक्ति
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
33. ( क्र. 5547 ) श्री अर्जुन सिंह काकोडि़या : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या यह सही है कि म.प्र. राज्य अल्पसंख्यक आयोग द्वारा प्रमुख सचिव, पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक कल्याण विभाग को पत्र क्रमांक म.प्र.रा.अ.आ./ एफ/67/स्था./5683 दिनांक 21.02.2002 है जिसमें दैनिक वेतनभोगी स्वीकृत पदों का उल्लेख भी किया गया है तथा आयुक्त पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक कल्याण को पत्र क्र. म.प्र.रा.अ.आ./3549 दिनांक 17.01.2008 प्रेषित किया गया था जिसमें आयोग के दैनिक वेतनभोगी कर्मचारियों की नियुक्ति दिनांक और नियुक्तिकर्ता अधिकारी के नाम की जानकारी दी गई थी? यदि हाँ, तो क्या जानकारी दी गई थी? (ख) क्या अल्पसंख्यक आयोग में अध्यक्ष/सदस्यगणों के निजी स्थापना में पदस्थ तीन कर्मचारियों को नियमित/विनियमित किया गया है? विधानसभा प्रश्न क्रमांक 459 दिनांक 28.12.2020 के उत्तर में विभाग द्वारा स्वीकार किया गया है कि तीन कर्मचारियों को नियमित/विनियमित किया गया है परंतु शेष कर्मचारियों को गलत नियम का हवाला देते हुए कार्य से निकाल दिया गया है? जबकि नियमित किये गये और निकाले गये कर्मचारी की नियुक्ति एक ही नियम प्रक्रिया के अंतर्गत थी? यदि हाँ, तो तीन कर्मचारियों को किस नियम के तहत नियमित/विनियमित किया गया है तथा निकाले गये कर्मचारियों को किन नियम के तहत निकाला गया है? नियम/प्रक्रिया सहित जानकारी देवें। (ग) क्या सही है कि सामान्य प्रशासन विभाग की नोटशीट 28.08.2020 एवं 29.08.2019 को मुख्यमंत्री कार्यालय की टीप क्रमांक 2116/सीएमएस/बीसीएस/2019, 21.08.2019 के परिपालन में सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा क्या परामर्श विभाग प्रमुख को दिया गया था? उक्त परामर्श के अनुसार श्री रमेश थेटे, सचिव/आयुक्त पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक कल्याण द्वारा लिये गये निर्णय/अभिमत अनुसार प्रश्न दिनांक तक आदेश नहीं जारी करने के क्या कारण हैं? आदेश कब तक जारी किये जायेंगे? यदि नहीं, तो क्यों? कारण स्पष्ट करें। (घ) प्रश्नांश (क), (ख) एवं (ग) अनुसार सामान्य प्रशासन विभाग के नियम/निर्देशों का पालन नहीं करने वाले दोषी अधिकारियों/कर्मचारियों पर क्या कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं तो क्यों?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण ( श्री रामखेलावन पटेल ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
एम.पी.स्टेट को-आपरेटिव डेयरी फेडरेशन 2012 की भर्ती प्रक्रिया
[पशुपालन एवं डेयरी]
34. ( क्र. 5595 ) श्री सुनील उईके : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या एम.पी.स्टेट को-आपरेटिव डेयरी फेडरेशन 2012 की भर्ती प्रक्रिया पूर्ण करने हेतु कोई कमेटी गठित की गई थी? यदि हाँ, तो स्वीकृति आदेश की प्रति देवें। यदि नहीं, तो क्यों? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार गठित कमेटी या सक्षम अधिकारी द्वारा चयन प्रक्रिया में प्रतीक्षा सूची जारी करने में रिक्त पदों के विरूद्ध उम्मीदवारों का अनुपात निर्धारित किया था? यदि हाँ, तो स्वीकृति की प्रति उपलब्ध करायें। यदि नहीं, तो क्यों? (ग) उक्त भर्ती प्रक्रिया की प्रतीक्षा सूची दिनांक 15/10/2013 एवं 17/10/2013 के किन उम्मीदवारों द्वारा अपने बॉयोडाटा एम.पी.सी.डी.एफ. कार्यालय में जमा किये उनकी, पदवार सूची जमा करने की दिनांक सहित एवं क्या प्रतीक्षा सूची के उम्मीदवारों को नियुक्ति प्रदान की गई है? यदि हाँ, तो आदेश की प्रति देवें। यदि नहीं, तो क्यों? (घ) ग्वालियर सहकारी दुग्ध संघ तकनीशियन पद अपिव के 01 पद हेतु मैरिट सूची जारी की गई थी तो, क्या उक्त पद की प्रतीक्षा सूची भी जारी की गई थी? यदि हाँ, तो प्रतीक्षा सूची उपलब्ध करायें। यदि नहीं, तो क्यों? (ड.) भर्ती प्रक्रिया में की गई अनियमितताओं एवं नियुक्ति के संबंध में विनोद कुमार ठाकरे के आवेदन पर कार्यवाही करने हेतु पूर्व पशु पालन मंत्री के पत्र क्रं. 1863 दिनांक 27.09.2019 में की गई कार्यवाही एवं आदेश की प्रति उपलब्ध करावें।
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) से (ड.) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
सर्वोच्च अदालत के आदेश का पालन
[वन]
35. ( क्र. 5609 ) श्री धरमू सिंग सिरसाम : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सर्वोच्च अदालत ने याचिका क्रमांक 202/95 आई ए क्रमांक 2619-2621/2009 आदेश दिनांक 02 सितम्बर 2013 में बैतूल जिले से संबंधित डीनोटिफाईड जमीन के सबंध में क्या आदेश दिया है उसका पालन किए जाने के सबंध में वन विभाग ने किस दिनांक को क्या कार्यवाही की है। (ख) बैतूल जिले के अन्तर्गत किस दिनांक को कितनी भूमि डीनोटिफाईड की गई संरक्षित वन सर्वे में शामिल कितने ग्रामों की समस्त भूमि डीनोटिफाईड की गई इन ग्रामों की कितनी भूमि सर्वे में शामिल की गई। (ग) डीनोटिफाईड भूमियों को वन भूमि प्रतिवेदित किए जाने, वन भूमि बताकर कार्यवाही किए जाने का वर्तमान में क्या क्या कारण रहा है, कितनी डीनोटिफाईड भूमियों के वन अधिकार दावे मान्य अमान्य किए गए है।
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) प्रश्नांकित याचिका आई.ए. में पारित आदेश में केवल कक्ष क्रमांक 385-386 (नया 342-343) की 10.190 हेक्टेयर भूमि के संबंध में आदेश दिया गया है कि संबंधित भूमि को वन (संरक्षण) अधिनियम, 1980 के संबंध में गैर वनभूमि माना जाये। उक्त आदेश के पश्चात वनमंडल द्वारा उक्त भूमि पर वन (संरक्षण) अधिनियम, 1980 के अंतर्गत कार्यवाही नहीं की गई है। (ख) प्रश्नांकित जिले के अंतर्गत डीनोटिफाईड भूमि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। सर्वे-डिमारकेशन स्कीम में शामिल 680 ग्रामों में से 243 ग्रामों को भारतीय वन अधिनियम, 1927 की धारा 34'अ' के तहम अधिसूचना दिनांक 10.07.1972 मध्यप्रदेश राजपत्र प्रकाशन दिनांक 15 सितम्बर 1972 से डीनोटिफाईड किया गया। राजपत्र में प्रकाशित अधिसूचना में ग्रामों के समक्ष खसरा नम्बर एवं रकबे का उल्लेख नहीं है। उक्त 243 ग्रामों की 53681.30 एकड़ (21724.080 हे.) भूमि सर्वे-डिमारकेशन स्कीम में दर्ज है। (ग) वन विभाग के परिपत्र क्रमांक एफ 5/43/1990/10-3 दिनांक 14.05.1996 से जारी निर्देशों के परिप्रेक्ष्य में 2875.515 हेक्टेयर भूमि नारंगी वनखण्डों में शामिल की गई, जिसमें से 2411.314 हेक्टेयर भूमि भारतीय वन अधिनियम, 1927 की धारा 4 के प्रस्तावित कर वर्किंग प्लान में शामिल है। शेष 464.200 हेक्टेयर भूमि वर्किंग प्लान में शामिल नहीं है। अपितु माननीय सर्वोच्च न्यायालय के आदेश दिनांक 12.12.1996 में उल्लेखित वन की परिभाषा अनुसार भूमियों पर वन (संरक्षण) अधिनियम, 1980 के प्रावधान लागू है। शेष प्रश्नांश की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है।
संरक्षित वन सर्वे में शामिल भूमि
[वन]
36. ( क्र. 5614 ) श्री ब्रह्मा भलावी : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) उत्तर वनमण्डल बैतूल के ग्राम सोनाघाटी, टिकारी, झगड़िया, कटंगी, डुल्हारा एवं सिवनपाट के निस्तार पत्रक में किस मद में दर्ज किस खसरा नम्बर के कितने रकबे को संरक्षित वन सर्वे में शामिल किया, उसमें से कितना रकबा किस दिनांक को अंतरित, आवंटित एवं डीनोटिफाईड किया गया। (ख) इनमें से कितनी भूमि वर्किंग प्लान में शामिल है, कितनी भूमि पर वन विभाग का कब्जा है भूमि वर्किंग प्लान में शामिल कर कब्जा किए जाने की अनुमति का आदेश कलेक्टर बैतूल या अनुविभागीय अधिकारी राजस्व बैतूल और शाहपुर ने किस दिनांक को दिया है। (ग) डीनोटिफाईड भूमि के संबंध में सर्वोच्च अदालत ने याचिका क्रमांक 202/95 की आई.ए. क्रमांक 2619-2621/2009 दिनांक 2 सितंबर 2013 को क्या आदेश दिया है, डीनोटिफाईड भूमियों पर वन संरक्षण कानून 1980 के किन प्रावधानों को अदालत ने लागू माना है।
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) वनमंडल उत्तर बैतूल के ग्राम सोनाघाटी, टिकारी, झगड़िया, कटंगी, डुल्हारा एवं सिवनपाट से संबंधित राजस्व अभिलेखों में दर्ज मद की जानकारी वन विभाग द्वारा संधारित नहीं की जाती है। शेष प्रश्नांश की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। भारतीय वन अधिनिमय, 1927 की धारा 4 (1) के तहत अधिसूचित एवं प्रस्तावित भूमि भारत सरकार की स्वीकृति से वर्किंग-प्लान में नियंत्रण एवं वैज्ञानिक प्रबंधन की दृष्टि से शामिल की गई है। अतः शेष प्रश्नांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार है। माननीय सर्वोच्च न्यायालय की याचिका क्र.202/95 की आई.ए.क्रमांक 2619-2621/2009 में दिनांक 02.09.2013 को जारी आदेश में सिर्फ कम्पार्टमेंट नं. 385-386 (नया 342-343) की 10.190 हेक्टेयर भूमि के संबंध में आदेश पारित किया है कि संबंधित भूमि को वन (संरक्षण) 1980 के सन्दर्भ में गैर वनभूमि माना जावे।
व्यक्तिगत दावे मान्य/अमान्य करना
[जनजातीय कार्य]
37. ( क्र. 5615 ) श्री ब्रह्मा भलावी : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) जनवरी 2008 से लागू वन अधिकार कानून 2006 के तहत बैतूल जिले के ग्राम टिकारी, सोनाघाटी, झगड़िया, कटंगी, डुल्हारा एवं सिवनपाट के किस दावेदार ने किस खसरा क्रमांक के कितने रकबे का दावा प्रस्तुत किया उसमें से किस दावे को वनाधिकार समिति एवं ग्राम सभा ने किस दिनांक को मान्य और अमान्य किया। (ख) किस दावेदार का दावा उपखण्ड स्तरीय समिति, जिला स्तरीय समिति ने किस दिनांक को किस-किस आधार पर अमान्य किया वनाधिकार समिति एवं ग्राम सभा द्वारा मान्य दावे को अमान्य किए जाने का प्रावधान एवं अधिकार किस धारा एवं कंडिका में दिया गया है। (ग) राजपत्र में दिनांक 15 सितम्बर 1972 को डीनोटिफाईड भूमियों के दावे मान्य एवं अमान्य किए जाने का क्या कारण रहा है ग्राम टिकारी, झगड़िया एवं डुल्हारा की संरक्षित वन सर्वे में शामिल कितनी भूमियों पर कितने दावे मान्य एवं अमान्य किए गए है।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जनवरी 2008 से लागू वन अधिकार अधिनियम 2006 के तहत बैतूल जिले के ग्राम टिकारी, सोनाघाटी, झगड़िया, कटंगी, डुल्हारा एवं सिवनपाट के दावेदारों द्वारा प्रस्तुत दावों का वनाधिकार समिति, ग्रामसभा, उपखण्ड एवं जिला स्तरीय द्वारा लिये गये निर्णयों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र -एक अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। अनुसूचित जनजाति और अन्य परम्परागत वन निवासी (वन अधिकारों की मान्यता) 2008 एवं संशोधन नियम 2012 के नियम-6 में उपखण्ड स्तरीय समिति के कृत्य एवं नियम-8 में जिला स्तरीय समिति के कृत्य दर्शित है, जिसकी प्रति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र -दो अनुसार है। (ग) अनुसूचित जनजाति और अन्य परम्परागत वन निवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम 2006 के नियम 2 (घ) में उल्लेखित वनभूमि के वन अधिकार पत्र प्रदान किये जा रहे है। ग्राम टिकारी, झगड़िया एवं डूल्हरा की संरक्षित वन सर्वे में शामिल भूमियों पर मान्य एवं अमान्य किये गये दावों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-तीन अनुसार है।
वनाधिकार समिति की बैठक
[जनजातीय कार्य]
38. ( क्र. 5620 ) श्री ब्रह्मा भलावी : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) जनवरी 2008 से लागू वन अधिकारी कानून 2006, नियम 2008 के अनुसार अप्रैल 2020 से प्रश्नांकित दिनांक तक मुख्य सचिव की अध्यक्षता में राज्य स्तरीय वनाधिकार समिति की किस दिनांक को हुई बैठक में क्या-क्या निर्णय लिया गया किस दिनांक को पत्र जारी किया निर्णय एवं जारी पत्रों की प्रति सहित बतावें। (ख) उपरोक्त अवधि में भारत सरकार वन एवं पर्यावरण मंत्रालय और जनजातीय कार्य मंत्रालय नई दिल्ली ने वन अधिकार कानून से संबंधित किस-किस विषय पर किस दिनांक को क्या-क्या आदेश एवं निर्देश दिए है। (ग) भारत सरकार द्वारा दिए गए किस आदेश, निर्देश के संबंध में राज्य में क्या-क्या कार्यवाही की गई क्या-क्या कार्यवाही वर्तमान में लंबित है, वह कब तक की जावेगी?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) अप्रैल 2020 से प्रश्नांकित दिनांक तक मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित राज्य स्तरीय वनाधिकार समिति की बैठक न होने से शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) प्रश्नांश में उल्लेखित भारत सरकार वन एवं पर्यावरण मंत्रालय की जानकारी निरंक है। जनजातीय कार्य मंत्रालय नई दिल्ली ने वन अधिकार अधिनियम 2006 के तहत विशेष पिछड़ी जनजाति समूहों की बसाहटों के हेबीटेट राईट्स प्रदान किये जाने हेतु दिनांक 21.02.2020 को गाईड लाईन तैयार करने हेतु विशेष उप समूह गठित किया गया। विशेषज्ञ उप समूह द्वारा तैयार ड्राफ्ट गाईड लाईन भारत सरकार, जनजातीय कार्य मंत्रालय, नई दिल्ली के पत्र दिनांक 10.12.200 द्वारा उपलब्ध कराई गई। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'एक' अनुसार है। (ग) उत्तरांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में उक्त ड्राफ्ट गाईड लाईन पर सूक्ष्म परीक्षण संचालक, आदिम जाति अनुसंधान एवं विकास संस्था मध्यप्रदेश द्वारा किया जा है। । जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'दो' अनुसार है। वन अधिकार अधिनियम 2006 की प्रक्रिया अर्द्ध न्यायिक स्वरूप की होने से समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है
ग्रामसभा एवं ग्राम पंचायत के प्रस्ताव
[जनजातीय कार्य]
39. ( क्र. 5622 ) श्री ब्रह्मा भलावी : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) बैतूल ब्लॉक के ग्राम टिकारी, सोनाघाटी, झगड़िया एवं घोड़ाडोंगरी ब्लॉक के ग्राम कटंगी, डुल्हारा एवं सिवनपाट की ग्रामसभा ने जनवरी 2008 से प्रश्नांकित दिनांक तक किस खसरा नम्बर के कितने रकबे पर किसके कब्जे को मान्य एवं अमान्य कर वन अधिकार पत्र दिए जाने का किस दिनांक को प्रस्ताव लिया। (ख) ग्रामसभा द्वारा मान्य किस काबिज के दावे को किस-किस आधार पर किसके द्वारा किस दिनांक को अमान्य किया गया, दावा अमान्य किए जाने के पूर्व किस दावेदार को किस दिनांक को सुनवाई का अवसर दिया, यदि सुनवाई का अवसर नहीं दिया तो उसका कारण बतावें। (ग) ग्रामसभा द्वारा मान्य दावे को किस-किस आधार पर किस कानून, नियम के तहत किसकी रिपोर्ट पर अमान्य किया जा सकता है इस संबंध में किस धारा, कंडिका में क्या-क्या उल्लेख किया गया है।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र - एक अनुसार है। (ख) जनवरी 2008 से वर्तमान तक के अमान्य दावों पर पुनः परीक्षण कर दावों को मान्य/अमान्य की कार्यवाही एम.पी. वनमित्र पोर्टल पर प्रचलन में है। अतः शेष प्रश्नांश उपस्थित नहीं होता। (ग) अनुसूचित जनजाति और अन्य परम्परागत वन निवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम 2006 एवं मान्यता नियम 2008 की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- दो अनुसार है।
कोल विकास अभिकरण योजना का क्रियान्वयन
[जनजातीय कार्य]
40. ( क्र. 5639 ) श्री संजय सत्येन्द्र पाठक : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या मध्यप्रदेश शासन द्वारा अनुसूचित जाति कल्याण विभाग द्वारा कोल समाज के उत्थान के लिए कोल विकास अभिकरण का गठन किया गया है? यदि हाँ, तो गठन दिनांक से प्रश्न दिनांक तक उक्त समाज के उत्थान के लिए क्या-क्या योजनाओं का निर्धारण किया जाकर कटनी जिले में क्रियान्यन कराया गया, योजनावार, हितग्राही संख्यावार, वर्षवार कराये कार्य एवं लाभान्वित कृषकों की जानकारी देवें? (ख) यदि हाँ, तो इस वित्तीय वर्ष में जिले को कितना आवंटन प्राप्त हुआ एवं योजनावार चयन किये गये कार्य कितने पूर्ण हुये एवं कितने कार्य निर्माणाधीन है जानकारी कार्यवार, हितग्राही संख्या एवं आवंटनवार देवें? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के परिप्रेक्ष्य में इस समाज के उत्थान हेतु विभाग द्वारा वर्तमान में नवीन योजना क्या प्रस्तावित है यदि हाँ, तो जानकारी देवें?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी नहीं। मध्यप्रदेश शासन, जनजातीय कार्य विभाग द्वारा कोल विकास अभिकरण का गठन किया गया है। गठन दिनांक से प्रश्न दिनांक तक उक्त समाज के उत्थान के लिए किये गये कार्यों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) इस वित्तीय वर्ष में जिले को आवंटन प्राप्त नहीं हुआ है। (ग) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
को-वैक्सीन के थर्ड फेज ट्रायल के संदर्भ में
[चिकित्सा शिक्षा]
41. ( क्र. 5646 ) श्री नीलांशु चतुर्वेदी : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भोपाल स्थित पीपुल्स मेडिकल कॉलेज को को-वैक्सीन के थर्ड फेस ट्रायल के अंतर्गत कितने लोगों को वैक्सीन लगाई गई? (ख) क्या यह शिकायत मिली है कि इन लोगों को यह नहीं बताया गया कि उन पर को-वैक्सीन का ट्रायल किया जा रहा है, न ही उन्हें नियमानुसार डायरी दी गई और न ही हेल्थ फालोअप किया गया? (ग) क्या को-वैक्सीन के थर्ड फेस ट्रायल में शामिल दीपक मरावी की मृत्यु पीपुल्स मेडिकल कॉलेज की लापरवाही के कारण हुई है?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) भोपाल स्थित पीपुल्स कॉलेज ऑफ मेडिकल साईंसेस एण्ड रिसर्च सेंटर भोपाल में को-वैक्सीन के थर्ड फेज ट्रायल के अंतर्गत इंवेस्टीगेशनल प्रोडक्ट (वैक्सी/प्लेसिबा) की प्रथम डोज 1724 व्यक्तियों को एवं द्वितीय डोज 1422 व्यक्तियों को लगाई गई। (ख) जी नहीं। को-वैक्सीन ट्रायल में भाग लेने वाले व्यक्तियों से सूचित सहमति प्राप्त की गई एवं उनका हेल्थ फालोअप किया गया। (ग) जी नहीं।
फर्जी तरीके से छात्रवृत्ति की राशि को आहरित किये जाना
[स्कूल शिक्षा]
42. ( क्र. 5650 ) श्री नीलांशु चतुर्वेदी : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शासन को शिवपुरी जिले के सरकारी और निजी स्कूलों में फर्जी छात्रों के नाम पर छात्रवृत्ति जारी होने और बैंक में उनके फर्जी खाते खोलकर राशि आहरित करने की शिकायत मिली है? (ख) यदि हाँ, तो इसमें कितने फर्जी छात्रों के नाम पर छात्रवृत्ति जारी होने और बैंक में उनके फर्जी खाते खोलकर कितनी राशि आहरित की गई है? (ग) इस मामले में क्या कार्यवाही की गई है?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। (ख) प्रश्नांश (क) के सबंध में कार्यालय कलेक्टर जिला शिवपुरी के पत्र क्र.826 दिनांक 15.02.21 द्वारा गठित समिति द्वारा जाँच की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है, जाँच निष्कर्ष के आधार पर नियत किया जा सकेगा। (ग) उत्तरांश ''ख'' अनुसार।
कलियासोत और केरवा क्षेत्र में वन आवरण कम होने से उत्पन्न स्थिति
[वन]
43. ( क्र. 5669 ) श्री सज्जन सिंह वर्मा : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भोपाल के कलियासोत और केरवा के चंदनपुरा, मेंडोरा, मेंडोरी एवं छावनी गांव बाघ भ्रमण क्षेत्र में फॉरेस्ट सर्वे ऑफ इंडिया की 2019 की रिपोर्ट के अनुसार वर्ष 2003 से 2008 तक की अवधि में कितने हेक्टेयर क्षेत्र में कितना फॉरेस्ट कवर (वन आवरण) कम हुआ है? (ख) क्या एनजीटी के निर्देश पर वन और राजस्व विभाग के संयुक्त अभियान के तहत कलियासोत और केरवा डेम क्षेत्र में डीम्ड फॉरेस्ट की रीकाउंटिंग और रीमैपिंग शुरू की गई है? यदि हाँ, तो रीकाउंटिंग और रीमैपिंग किये जाने के उपरांत कौन-कौन सा क्षेत्र डीम्ड फॉरेस्ट का है? (ग) उक्त वन आवरण क्षेत्र में किन-किन शैक्षणिक गतिविधियां, व्यवसायिक गतिविधियां एवं भवन निर्माण कार्यों को अनुमति किन शर्तों के आधार पर वन विभाग ने दी है? क्या यह अनुमति वैधानिक है? यदि नहीं, तो नियम विरूद्ध उक्त गतिविधि संचालित करने के लिये कौन-कौन उत्तरदायी है तथा उनके विरूद्ध क्या कार्यवाही की जायेगी?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) भारतीय वन सर्वेक्षण संस्थान देहरादून द्वारा प्रकाशित वन स्थिति प्रतिवेदन अनुसार वर्ष 2003 से 2008 तक की अवधि में भोपाल जिले में वन आवरण में कुल 54 वर्ग कि.मी. की वृद्धि हुई है। यह प्रतिवदेन जिले के लिये है, कलियासोत और केरवा के चंदनपुरा, मेंडोरा, मेंडोरी एवं छावनी गांव बाघ भ्रमण क्षेत्र की जानकारी पृथक से संधारित नहीं है। (ख) जी हाँ। रीकाउंटिंग और रीमैपिंग का कार्य प्रगति पर है। कार्य पूर्ण होने के उपरान्त ही डीम्ड फारेस्ट का क्षेत्र स्पष्ट हो सकेगा। (ग) विवरण संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। अनुमति वन संरक्षण अधिनियम 1980 के तहत् विधिवत दी गई है, जो वैधानिक है। अतः प्रश्नांश के शेष भाग का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
संचालित छात्रावासों में उपलब्ध सुविधायें
[स्कूल शिक्षा]
44. ( क्र. 5717 ) श्री शैलेन्द्र जैन : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सागर जिले में स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा कितने, कहाँ-कहाँ एवं किस-किस श्रेणी के छात्रावास संचालित है तथा प्रत्येक में कितने-कितने विद्यार्थी प्रवेशित है? (ख) उक्त छात्रावासों में शासन से क्या-क्या सुविधायें मुहैया कराई जाती है? इनमें प्रवेश किन-किन नियमों तथा पात्रताओं के आधार पर दिया जाता है? (ग) क्या सागर नगर में स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा कोई सामान्य वर्ग के छात्र-छात्राओं हेतु छात्रावास संचालित है? यदि नहीं, तो क्या शासन सामान्य वर्ग के दूरस्थ अंचलों से आने वाले छात्र-छात्राओं को होने वाली असुविधा को देखते हुये कोई छात्रावास मुहैया कराये जाने पर विचार करेगा तथा कब तक? (घ) यदि नहीं, तो क्या कारण है?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ग) एवं (घ) जी नहीं। समग्र शिक्षा अभियान के अंतर्गत वर्गवार छात्रावास स्वीकृति का प्रावधान नहीं है। जिला स्तरीय उत्कृष्ट विद्यालयों में 100 सीटर बालक तथा 100 सीटर बालिका छात्रावास स्वीकृत है। इन छात्रावासों में सभी वर्ग के विद्यार्थियों को प्रवेश की सुविधा है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
माझी जाति एवं उनकी उपजातियों को पिछड़ा वर्ग की सूची से विलोपित किया जाना
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
45. ( क्र. 5718 ) श्री शैलेन्द्र जैन : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या माझी जाति एवं इनकी उपजातियां केवट, मल्लाह, भोई, ढीमर, रायकवार आदि पिछड़ा वर्ग की सूची क्रमांक 12 पर एवं अनुसूचित जनजाति के क्रमांक 29 पर भी शामिल है? यदि हाँ, तो इसका क्या कारण है? (ख) क्या यह भी सही है कि सन् 1984 के पूर्व माझी जाति एवं इनकी अन्य उपजातियाँ केवल अनुसूचित जनजाति के क्रमांक 29 पर ही शामिल थी, इसके बाद पिछड़ा वर्ग की सूची क्रमांक 12 पर जोड़े जाने का क्या कारण है? (ग) क्या शासन इस दोहरे मापदण्ड को समाप्त कर माझी जाति एवं इनकी उपजातियों को पिछड़ा वर्ग की सूची से विलोपित करेगा तथा कब तक? यदि नहीं, तो इसका क्या कारण है?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण ( श्री रामखेलावन पटेल ) : (क) से (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
अ.जा. बस्ती विकास योजना में स्वीकृत राशि
[अनुसूचित जाति कल्याण]
46. ( क्र. 5723 ) श्री महेश परमार : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या वित्तीय वर्ष 2019-20 में राज्य शासन ने पत्र क्रमांक 196/1648/2019/4-26 भोपाल दिनांक 24/02/2020 को जारी पत्र अनुसार ग्राम सालाखेड़ी (मालीखेड़ी), ग्राम लोध, में कुल 25 निर्माण कार्यों के लिए कुल 50 लाख की राशि स्वीकृत की गयी थी? यदि हाँ, तो उक्त राशि कलेक्टर ज़िला उज्जैन के पत्र क्रमांक 2474 उज्जैन दिनांक 07/02/2020 के द्वारा लौटाये जाने से क्या प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र का विकास कार्य अवरुद्ध नहीं हुआ है? यदि हुआ है तो उत्तरदायी अधिकारियों पर क्या कार्यवाही की जाएगी? (ख) क्या RES उज्जैन संभाग उज्जैन के पत्र क्रमांक 2448 दिनांक 27/08/2020 के द्वारा कार्य के निरीक्षण एवं सुपरविजन के लिए पर्याप्त मात्रा में उपयंत्री उपलब्ध नहीं होने के कारण उक्त कार्य ग्राम पंचायत से कराने के अनुरोध किया था? यदि हाँ, तो उज्जैन ज़िले के DDO कोड 4302506001 में वित्तीय वर्ष 2019-20 की स्वीकृत राशि कब तक डाली जाएगी? (ग) क्या अनुसूचित जाति बस्ती विकास योजना की निर्माण एजेंसी निर्धारित नहीं होने के कारण कुल 25 कार्यों के लिए 50 लाख की प्रशासकीय कार्यों के बाद भी प्रश्नकर्ता के विधानसभा अ.जा. बस्ती के विकास कार्यों के लिए शासकीय प्रक्रिया के कारण बाधा क्यों उत्पन्न हो रही है?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ। योजना नियम में प्रावधान अनुसार कलेक्टर द्वारा निर्धारित कार्य एजेंसी ग्रामीण यांत्रिकी सेवा के बी.सी.ओ. में उपलब्ध कराये जाने हेतु राशि समर्पित की गई थी। स्वीकृत राशि कार्य एजेंसी के विभाग के बी.सी.ओ. में उपलब्ध करा दी गई थी। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) जी हाँ, प्रश्नांश (क) में उल्लेखित कार्य वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिये स्वीकृत किये गये थे जो कि वित्तीय वर्ष 2019-20 में अप्रारंभ रहने से शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं, प्रश्नांश (क) में उल्लेखित कार्य वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिये स्वीकृत किये गये थे जिसकी कार्य एजेंसी का निर्धारण कलेक्टर द्वारा किया गया था तथा निर्धारित कार्य एजेंसी के बी.सी.ओ. में राशि भी जारी की गई थी। स्वीकृत कार्यों के वित्तीय वर्ष 2019-20 में अप्रारंभ रहने से शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पेंशन भुगतान की जानकारी
[जनजातीय कार्य]
47. ( क्र. 5765 ) श्री सुरेन्द्र सिंह हनी बघेल : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या श्रीमती फुलकुवरबाई जिनके पति स्व. मांगीलाल पांचाल निवासी सुसारी तह. कुक्षी जिला धार में शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, तलवाड़ा विकासखण्ड, निसरपुर, जिला-धार में भृत्य के पद पर पदस्थ थे, की मृत्यु उपरांत दिनांक 28/7/2014 से परिवार पेंशन की पात्रता आती है? इससे संबंधित समस्त अभिलेखों की प्रमाणित प्रति देवें। (ख) प्रश्नांश (क) के परिप्रेक्ष्य में यदि हाँ, तो फिर प्रश्न दिनांक तक उनकी पेंशन प्रारंभ क्यों नहीं हो पाई है क्या कारण है इसके लिए कौन उत्तरदायी है नाम, पदनाम सहित बतावें? (ग) विलंब के लिए जिम्मेदारों पर क्या कार्यवाही कब तक की जावेगी?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) से (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
को-वैक्सीन की थर्ड फेस ट्रायल की जानकारी
[चिकित्सा शिक्षा]
48. ( क्र. 5817 ) श्री हर्ष यादव : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) भोपाल स्थित पीपुल्स मेडिकल कॉलेज में को-वैक्सीन के थर्ड फेस ट्रायल के अंतर्गत कितने लोगों को वैक्सीन लगाई गई? (ख) क्या यह शिकायत मिली है इन लोगों को यह नहीं बताया गया कि उन पर को-वैक्सीन का ट्रायल किया जा रहा है, न ही उन्हें नियमानुसार डायरी दी गई और न ही हेल्थ फॉलोअप किया गया? (ग) क्या को-वैक्सीन के थर्ड फेस ट्रायल में शामिल दीपक मरावी की मृत्यु पीपुल्स मेडिकल कॉलेज की लापरवाही के कारण हुई हैं? हाँ तो किस की जिम्मेदारी तय की गई। (घ) कोरोना महामारी से निपटने के लिए 31 जनवरी 2021 तक प्रदेश सरकार को केन्द्र सरकार से अलग-अलग तारीखों में किस-किस मद में कितनी-कितनी राशि प्राप्त हुई है? (ड.) 31 जनवरी 2021 तक उपरोक्त में से किस-किस मद में कितनी-कितनी राशि खर्च की गई है?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) भोपाल स्थित पीपुल्स कॉलेज आफ मेडिकल साईंसेस एण्ड रिसर्च सेन्टर भोपाल में को-वैक्सीन के थर्ड फेज ट्रायल के अंतर्गत इंवेस्टिगेशन प्रोडक्ट (वैक्सीन/प्लेसिबा) की प्रथम डोज 1724 व्यक्तियों को एवं द्वितीय डोज 1422 व्यक्तियों को लगाई गई। (ख) जी नहीं। को-वैक्सीन ट्रायल में भाग लेने वाले व्यक्तियों से सूचित सहमति प्राप्त की गई एवं उनका हेल्थ फालोअप किया गया। (ग) जी नहीं। (घ) केन्द्र से प्राप्त राशि का विवरण संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ड.) मद अनुसार व्यय राशि का विवरण संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है।
शिक्षकों के लंबित पेंशन प्रकरण
[स्कूल शिक्षा]
49. ( क्र. 5871 ) श्रीमती मालिनी लक्ष्मण सिंह गौड़ : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या शिक्षा विभाग के इन्दौर जिले में दिनांक 10/02/2021 की स्थिति में शिक्षकों और कर्मचारियों के पेंशन के कई प्रकरण लंबित है यदि हाँ, तो अक्टूबर 2020 से पहले के लंबित प्रकरणों की संख्या बतावें? (ख) क्या तत्कालीन शिक्षा मंत्री स्व. लक्ष्मण सिंह गौड़ के समय में एक आदेश निकला था कि शिक्षक के रिटायरमेंट वाले दिन ही उसको पी.पी.ओ. और भुगतान मिल जाना चाहिये अगर विशेष कारण नहीं होते हुये नहीं मिला तो अधिकारी पर कार्यवाही की जावेगी। उक्त आदेश की प्रति प्रस्तुत करें और आदेश का पालन अभी नहीं हो रहा है तो कारण बतावें? (ग) इन्दौर जिले में अक्टूबर 2020 के पहले सेवानिवृत्त के पेंशन प्रकरण लंबित हो तो उनके नाम सेवा निवृत्ति दिनांक बतावें कारण भी बतावें।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। इंदौर जिले में शिक्षा विभाग अंतर्गत 14 पेंशन प्रकरण लंबित है। (ख) उत्तरांश "क" अनुसार लंबित पेंशन प्रकरण विशेष कारणों से लंबित होने के कारण शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। आदेश की प्रति संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र "एक" अनुसार है। शेषांश की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र "दो" अनुसार है। (ग) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र "दो" अनुसार है।
जनजातियों की बस्तियों में विकास कार्यों की स्वीकृति
[विमुक्त, घुमक्कड़ एवं अर्द्धघुमक्कड़ जनजाति कल्याण]
50. ( क्र. 5903 ) श्रीमती झूमा डॉ. ध्यानसिंह सोलंकी : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भीकनगांव विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत विमुक्त घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जनजातियों के अंतर्गत कुल कितने परिवार एवं सदस्य निवासरत है तथा इनकी कौन-कौन से ग्रामों में कितनी अबादी है? ग्रामवार जानकारी उपलब्ध करायें तथा यह भी बतायें की वर्ष 2013-14 से प्रश्न दिनांक तक इनकी बस्तियों के विकास के लिए शासन द्वारा कौन-कौन से कार्य करायें गये है? बस्ती का नाम उसके कार्य विवरण एवं लागत तथा की गई वर्ष के विवरण सहित जानकारी प्रदाय करें? (ख) क्या वितीय वर्ष में विमुक्त घुमक्कड़ एवं अर्द्ध घुमक्कड़ जनतातियों के बस्तियों के विकास के लिए बजट आवंटन किया जायेगा? हाँ, तो भीकनगांव विधानसभा के अंतर्गत कौन-कौन से कार्य प्रस्तावित है? नहीं तो क्या कारण है?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण ( श्री रामखेलावन पटेल ) : (क) विस्तृत जातिगत सर्वेक्षण के अभाव में जानकारी उपलब्ध नहीं है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार। (ख) जी हाँ। योजना हेतु बजट सम्पूर्ण प्रदेश के लिए प्रावधानित है, विधानसभावार नहीं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार।
अनुकंपा नियुक्ति की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
51. ( क्र. 5905 ) श्री पारस चन्द्र जैन : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश शासन स्कूल शिक्षा विभाग अंतर्गत अनुकंपा नियुक्ति हेतु उच्च योग्यताधारी अभ्यार्थियों को भी चतुर्थ श्रेणी के पद पर अनुकंपा नियुक्ति प्रदान की गई है? (ख) क्या विभाग में तत्समय पद रिक्त न होने अथवा अनुकंपा नियुक्ति हेतु निर्धारित 07 वर्ष की समयावधि पूर्ण होने के कारण उच्च योग्यताधारी अभ्यार्थियों को भी चतुर्थ श्रेणी के पद पर अनुकंपा नियुक्ति हेतु मजबूरी में सहमति देना पड़ी है? क्या अभ्यार्थियों/कर्मचारियों द्वारा मजबूरी में दी गई सहमति न्यायिक सिद्धांतों के अनुसार मान्य रखे जाने योग्य है? इस प्रकार प्रश्नांश (क) अनुसार रोजगार देना अर्द्ध बेरोजगारी की श्रेणी में भी आता है? (ग) क्या वर्तमान अनुकंपा नियुक्ति हेतु नियम परिवर्तित करने से प्रयोगशाला तकनीशियन/सहायक शिक्षक विज्ञान, सहायक ग्रेड-3 के पद रिक्त हैं? (घ) क्या उच्च योग्यताधारी अभ्यार्थियों की शैक्षणिक योग्यता और तत्समय मजबूरी में दी गई सहमति को दृष्टिगत रखते हुए उन्हें शैक्षणिक योग्यता अनुसार एवं शासन नियमानुसार प्रयोगशाला तकनीशियन/सहायक शिक्षक विज्ञान, सहायक ग्रेड-3 के पदों पर अपग्रेड करेंगे? यदि हाँ, तो समय-सीमा बतायें? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) एवं (ख) जी हाँ, आवेदकों से रिक्त पद की उपलब्धता अनुसार सहमति प्राप्त होने के उपरांत चतुर्थ श्रेणी के पद पर भी अनुकंपा नियुक्ति प्रदान की जाती है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जी नहीं। प्रावधान नहीं होने से। (घ) जी नही। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
उत्कृष्ट शिक्षक/व्याख्याताओं को प्रोत्साहन स्वरूप लेपटॉप का प्रदाय
[स्कूल शिक्षा]
52. ( क्र. 5915 ) श्री योगेन्द्र सिंह : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) माध्यमिक शिक्षा मण्डल भोपाल द्वारा अपने संचालित स्कूलों, आदर्श उच्चतर माध्यमिक विद्यालय टी.टी.नगर, भोपाल में कार्यरत उत्कृष्ट शिक्षक एवं व्याख्याताओं द्वारा उनके प्रयासों से विगत वर्षों में अनेक छात्र/छात्राओं द्वारा म.प्र. की टॉप-टेन मैरिट सूची में स्थान प्राप्त कर संस्था का नाम प्रदेश में गौरान्वित किया गया था, ऐसे उत्कृष्ट शिक्षक एवं व्याख्याताओं को प्रोत्साहन स्वरूप लेपटॉप से वंचित क्यों और कैसे किया गया है? (ख) संस्था में प्रोत्साहन स्वरूप किन-किन शिक्षकों को लेपटॉप प्रदान किया गया है? उनके कितने छात्र मैरिट सूची में कब-कब आये, उन छात्रों के नाम वर्षवार तथा विषयवार अवगत करायें। (ग) संस्था में लेपटॉप उत्कृष्ट शिक्षकों/व्याख्याताओं का उत्कृष्ट परीक्षा परिणाम के आधार पर प्रोत्साहन स्वरूप प्रदान किया गया था तथा कुछ उत्कृष्ट शिक्षकों को लेपटॉप से वंचित कर उनके मनोबल को गिराने का प्रयास किया गया है? (घ) क्या उत्कृष्ट शिक्षक/व्याख्याताओं को प्रोत्साहन स्वरूप लेपटॉप से वंचित करने पर दोहरा मापदण्ड अपनाये जाने के कारण उत्कृष्ट शिक्षकों को प्रोत्साहन स्वरूप लेपटॉप कब तक प्रदान किया जायेगा?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) से (घ) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
क्रीड़ा शिक्षकों के रिक्त पदों पर शिक्षकों का पदांकन
[स्कूल शिक्षा]
53. ( क्र. 5916 ) श्री योगेन्द्र सिंह, श्री कुँवरजी कोठार : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2005 से 2020 तक प्रदेश के कितने अध्यापक संवर्ग शैक्षणिक संवर्ग के लोक सेवकों द्वारा विभागीय रूप से शासकीय तात्या टोपे राज्य शारीरिक शिक्षा महाविद्यालय शिवपुरी से सी.पी.एड./डी.पी.एड. उत्तीर्ण की है, जिलेवार संख्या पदनाम सहित अवगत करायें। (ख) प्रदेश के कितने स्कूलों में खेलकूद/व्यायाम शिक्षकों के पद रिक्त हैं, रिक्त पदों की जिलेवार पदों की संख्या क्या हैं, शैक्षणिक संवर्ग के प्रशिक्षित अध्यापक संवर्ग के लोक सेवकों का पदांकन किया जायेगा? (ग) व्यायाम शिक्षकों एवं खेलकूद शिक्षकों के रिक्त पदों पर विभागीय प्रशिक्षित सहायक शिक्षकों को व्यायाम शिक्षकों के पद पर पूर्व में पदांकन किया गया है, फिर अध्यापक संवर्ग के शिक्षकों को व्यायाम तथा खेलकूद शिक्षकों के रिक्त पदों पर कब तक पदांकन किया जायेगा? (घ) हाँ तो कब तक नहीं तो क्यों नहीं?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार। (ख) पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार। जी नहीं। (ग) व्यायाम निर्देशकों के रिक्त पद की पूर्ति विभागीय प्रशिक्षित सहायक शिक्षकों को व्यायाम निर्देशक के पद पर पदोन्नत उपरांत पदांकन किया गया है। अध्यापक संवर्ग को व्यायाम शिक्षक पद पर पदोन्नति का प्रावधान नहीं है। (घ) उत्तरांश ''ग'' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
वन खंडों में शामिल निजी भूमि को पृथक किया जाना
[वन]
54. ( क्र. 5952 ) श्री सुनील सराफ : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या अनुविभागीय अधिकारी/वन व्यवस्थापन अधिकारी के समक्ष भा.व.अ. की धारा 5 से 19 तक की जाँच के लिए लंबित वन खंडों में शामिल निजी भूमि को पृथक किए जाने के आदेश का अनूपपुर जिले में प्रश्नांकित दिनांक तक भी पालन नहीं किया गया? (ख) किस वनखण्ड के किस ग्राम के किस किसान के किस खसरा नंबर का कितना रकबा शामिल कर धारा 5 से 19 तक की जाँच के लिए लंबित है। इसमें से किस खसरा नंबर के कितने रकबे पर वन विभाग का कब्जा है? वन विभाग ने वृक्षारोपण किया है? पृथक-पृथक बतावें। (ग) 1 जून 2015 से प्रश्नांकित दिनांक तक किस वनखण्ड में शामिल कितनी भूमियों का सीमांकन करवाया गया? कितनी भूमि को वनखण्ड से पृथक किया गया? यदि सीमांकन करने व पृथक करने की कार्यवाही नहीं की गई है तो उसका कारण बतावें। कब तक कार्यवाही की जायेगी?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) से (ग) जानकारी संकलित की जा रही है।
रीवा कमिश्नर की आपत्ति के बाद भी दोषी अधिकारी की पदस्थापना
[जनजातीय कार्य]
55. ( क्र. 5985 ) श्री प्रदीप पटेल : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या कार्यालय कमिश्नर रीवा संभाग रीवा के पृ.क्रमांक/6 विकास/वि.जां./2018/5606 या अन्य क्रमांक रीवा दिनांक 11.12.2018 से आदेश जारी कर मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत सतना को जांचकर्ता अधिकारी एवं जिला संयोजक आदिम जाति कल्याण विभाग सतना को प्रस्तुतकर्ता अधिकारी नियुक्त कर 2 (दो) माह में जाँच प्रतिवेदन प्रस्तुत करने के आदेश जारी किये थे? क्या तत्कालीन कमिश्नर रीवा एस के पाल ने 8 बिंदुओं का आरोप पत्र एवं 8 बिंदुओं का आरोप विवरण प्रभारी संयोजक को जारी किया था? आरोप पत्र, आरोप विवरण एवं 11.12.2018 को जो जाँच आदेश जारी किया उसकी एक-एक प्रति दें। प्रश्नतिथि तक हुई जाँच की स्थिति का बिंदुवार विवरण दें। जाँच रिपोर्ट की एक प्रति दें। (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित दोषी अधिकारी के संबंध में कमिश्नर रीवा द्वारा जुलाई 2020 में प्रमुख सचिव आदिम जाति कल्याण (जनजाति कार्य) को पत्र लिखकर कहा कि उक्त अधिकारी को जिला संयोजक का प्रभार देने से विभागीय जाँच प्रभावित होगी। अत: इनके स्थान पर अन्य अधिकारी को सतना में पदस्थ किया जाये। उक्त पत्र का विवरण उपलब्ध करायें। (ग) प्रश्नांश (क) में वर्णित जाँच के आदेश के बाद प्रश्नतिथि तक अविनाश पांडे प्रभारी जिला संयोजक आदिम जाति कल्याण विभाग को सतना पुन: किन नियमों के तहत पदस्थ कर जाँच को प्रभावित करने का कार्य किया गया जबकि कमिश्नर रीवा ने इसके विरूद्ध प्रमुख सचिव को पत्र लिखकर अवगत एवं आपत्ति जताई थी? (घ) राज्य शासन कब तक उक्त अधिकारी को सतना से हटाकर अन्यत्र पदस्थ करेगा? जाँच अधिकारी के द्वारा जाँच समय पर पूर्ण न करने पर राज्य शासन उनके विरूद्ध कब व क्या कार्यवाही करेगा?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' एवं ''ब'' अनुसार है। जाँच प्रतिवेदन अप्राप्त है। (ख) जी हाँ, जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। (ग) प्रशासकीय निर्णय अनुसार श्री पाण्डेय को यथावत सतना में पदस्थ किया गया। (घ) ऐसा कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है, प्रस्ताव प्राप्त होने पर नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी।
लंबित विभागीय जाँच की जानकारी
[जनजातीय कार्य]
56. ( क्र. 5994 ) श्री सिद्धार्थ सुखलाल कुशवाहा : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या श्री अविनाश पाण्डे, क्षेत्र संयोजक, आदिम जाति एवं अनुसूचित जाति कल्याण विभाग मंडला में विगत वर्ष 2020 में किसी आदेश से प्रभारी जिला संयोजक आदिम जाति कल्याण विभाग सतना में पदस्थ किया गया है? (ख) क्या उक्त अधिकारी पूर्व में भी प्रभारी जिला संयोजक आदिम जाति कल्याण विभाग के पद पर सतना जिले में पदस्थ थे व पदस्थ अवधि में उक्त अधिकारी के द्वारा गंभीर अनियमितता किये जाने के कारण कमिश्नर रीवा द्वारा आदेश क्रमांक 313 दिनांक 11/12/2018 से विभागीय जाँच संस्थित की गई है, जो लंबित है? (ग) क्या कमिश्नर रीवा द्वारा विगत माह जुलाई 2020 में प्रमुख सचिव आदिम जाति कल्याण विभाग भोपाल को पत्र लिखा गया है कि इनको जिला संयोजक के प्रभार देने से विभागीय जाँच प्रभावित होगी इनके स्थान पर अन्य अधिकारी को पदस्थ किया जाए? (घ) यदि उपरोक्त प्रश्नांश सत्य हैं तो इनको सतना जिले में जिला संयोजक के पद पर क्यों पदस्थ रखा गया? क्या इन्हें हटाया जाएगा? यदि हाँ, तो कब तक?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ, शासन आदेश क्रमांक 621/2061/2019/25/1 दिनांक 26/06/2020 द्वारा श्री अविनाश पाण्डे को प्रभारी जिला संयाजक सतना के पद पर पदस्थ किया गया है (ख) जी हाँ (ग) कमिशनर रीवा द्वारा पत्र लिखा गया था। प्रशासकीय निर्णय अनुसार श्री पाण्डेय को यथावत सतना में पदस्थ किया गया। (घ) ऐसा कोई प्रस्ताव विचाराधीन नहीं है, प्रस्ताव प्राप्त होने पर नियमानुसार कार्यवाही की जावेगी।
वन समितियों की जानकारी
[वन]
57. ( क्र. 6001 ) श्री लाखन सिंह यादव : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ग्वालियर जिले के भितरवार विधानसभा क्षेत्र में कितनी-कितनी वन समितियां कार्य कर रही हैं? इनमें अध्यक्ष और सदस्य कौन-कौन व्यक्ति कब से हैं? उनके नाम, पता बतावें। (ख) उक्त समितियों का कार्यकाल कब से कब तक है और उनका क्षेत्राधिकार कितना है? (ग) उक्त समितियों में 1 जनवरी 2017 से प्रश्न दिनांक तक कब-कब किस-किस मद से कितनी राशि प्राप्त हुई है और उससे क्या-क्या कार्य कब-कब किए गये हैं? समस्त आय व्यय की जानकारी उपलब्ध करावें। क्या इन समितियों की उक्त अवधि में अनियमितताओं सम्बंधी शिकायतें मिली हैं? यदि हाँ, तो किस-किस समिति की किन-किन व्यक्तियों द्वारा कब-कब शिकायतें की गई हैं? शिकायतकर्ता का नाम,पता दें। क्या शिकायतों पर जाँच कराई गई? यदि हाँ, तो जाँचकर्ता कर्मचारी/अधिकारी का नाम,पद बतावें। क्या शिकायतों में अनियमिततायें पाई गई? यदि हाँ, तो उनमें कौन-कौन दोषी थे? उनके नाम बतावें। क्या उनके प्रति कोई दण्डात्मक कार्यवाही की गई है? यदि हाँ, तो क्या और कब? यदि नहीं, तो क्यों?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) ग्वालियर जिले के भितरवार विधानसभा क्षेत्र में 65 संयुक्त वन प्रबंधन समितियां कार्य कर रही हैं। अध्यक्ष और सचिव से संबंधित जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 पर है। (ख) जानकारी उत्तरांश 'क' के परिशिष्ट में है। (ग) प्रश्नाधीन संयुक्त वन प्रबंधन समितियों को 01 जनवरी 2017 से जनवरी 2021 तक राशि प्रदाय नहीं की गई है केवल फरवरी 2021 में भितरवार विधानसभा क्षेत्र में कार्यरत संयुक्त वन प्रबंधन समितियों को सुरक्षा मद में राशि प्रदाय की गई है, जिसकी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 (अ) में है। 1 जनवरी 2017 के पूर्व जमा राशि से कराये गये कार्यों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 (ब) में है। समितियों में अनियमितताओं से संबंधित कोई शिकायत प्राप्त नहीं हुई है, अत: शेष का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता है।
पदस्थ स्टॉफ की जानकारी
[स्कूल शिक्षा]
58. ( क्र. 6002 ) श्री लाखन सिंह यादव : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) ग्वालियर संभाग में प्रश्न दिनांक तक में कितने मॉडल स्कूल खोले गये हैं? इनमें से कितने मॉडल स्कूलों में हिन्दी मीडियम तथा इंग्लिश मीडियम में पढ़ाई कराई जाती है? अलग-अलग जिलेवार हिन्दी एवं इंग्लिश मीडियम स्कूलों की सूची दें। (ख) ग्वालियर जिले में किस-किस स्थान पर मॉडल स्कूल कब-कब खोले गये है? इनमें किस-किस मीडियम में पढ़ाई कराई जा रही है उन स्कूलों में कौन-कौन कर्मचारी/शिक्षक/स्टॉफ पदस्थ किया गया है? उनका नाम, पद, पदस्थापना दिनांक तथा शैक्षणिक योग्यता सहित स्कूलवार बतावें। (ग) क्या ग्वालियर जिले में संचालित मॉडल स्कूलों में जो पद स्कूल संचालन हेतु स्वीकृत है उन पदों में कितने-कितने पद किस-किस स्तर के कर्मचारियों/शिक्षकों/स्टाफ के रिक्त हैं स्कूलवार बतावें। इन रिक्त पदों को कब-तक भर लिया जावेगा? (घ) भितरवार विधानसभा क्षेत्र में कक्षा 1 से 12 तक किस-किस स्थान पर किस-किस नाम से किस कक्षा से किस कक्षा तक की शिक्षा के लिए प्राईवेट स्कूल किस-किस संचालक द्वारा कब से शिक्षा विभाग की स्वीकृति से संचालित किये जा रहे हैं। क्या स्कूल संचालक द्वारा वह स्वयं की बिल्डिंग में संचालित किये जा रहे हैं या किराये की बिल्डिंग में संचालित किये जा रहे हैं?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-3 अनुसार। पदों की पूर्ति सतत् प्रक्रिया है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-4 अनुसार।
माध्यमिक शिक्षा मंडल द्वारा परीक्षा आवेदन के नाम पर राशि वसूली
[स्कूल शिक्षा]
59. ( क्र. 6021 ) श्री यशपाल सिंह सिसौदिया : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या कक्षा 9 से 12वीं तक शैक्षणिक सत्र 2020-21 में नामांकन, परीक्षा आवेदन तथा अन्य आवेदन में त्रुटि सुधार के लिये प्रति विद्यार्थियों से 25 रूपये की राशि तथा विलंब शुल्क के रूप में प्रति विद्यार्थी 300 रूपये की राशि मा. शिक्षा मंडल द्वारा वसूली जा रही है? जानकारी देवें। (ख) प्रश्नांश (क) संदर्भित नामांकन एवं परीक्षा आवेदन त्रुटि सुधार की राशि इसी शैक्षणिक सत्र 2020-21 में वसूली जा रही है। पूर्व में आवेदन त्रुटि सुधार हेतु कोई शुल्क नहीं लिया जाता था तथा विद्यार्थियों को निशुल्क त्रुटि सुधार हेतु समय दिया जाता था? यदि हाँ, तो वर्तमान में शुल्क लेने के क्या कारण रहे हैं क्या इस हेतु बोर्ड की किसी कमेटी ने इस फैसले को लिया, यदि हाँ तो कमेटी के द्वारा लिये गये निर्णय की कारण सहित प्रतिलिपि देवें। (ग) शैक्षणिक सत्र 2020-21 में परीक्षा आवेदन त्रुटि सुधार की कुल कितनी राशि प्रश्न दिनांक तक वसूली जा चुकी है तथा कुल कितने छात्रों की परीक्षा एवं नामांकन आवेदन में त्रुटि सुधारी गई? (घ) गत 5 सालों में बोर्ड द्वारा लगातार परीक्षा फीस व अन्य फीस में बगैर शासन की अनुमति के फीस बढ़ाई जा रही है यदि हाँ, तो फीस बढ़ाने के लिये कौन से मापदंड को तय किया जाता है?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। पूर्व वर्ष में नामांकन एवं परीक्षा आवेदन त्रुटि सुधार की राशि रू. 300/- नियत थी। शैक्षणिक सत्र 2020-21 में नामांकन एवं परीक्षा आवेदन त्रुटि सुधार की राशि दिनांक 20.02.2021 तक रू.25/- तथा उक्त तिथि के पश्चात दिनांक 05.03.2021 तक रू. 300/- प्रति छात्र नियत की गई है। त्रुटि सुधार की शुल्क का निर्धारण पूर्व वर्षों से ही मण्डल अध्यक्ष स्तर से किया जाता रहा है। (ग) शैक्षणिक सत्र 2020-21 में त्रुटि सुधार हेतु 62852 छात्रों से कुल रू. 27,85,725/- (सत्ताईस लाख पिच्यासी हजार सात सौ पच्चीस मात्र) आनलाईन शुल्क मण्डल को प्राप्त हुई है। (घ) मण्डल अधिनियम व विनियम में प्रावधानों के अन्तर्गत शुल्क निर्धारण का अधिकार माध्यमिक शिक्षा मण्डल की परीक्षा व कार्यपालिका समिति को है। शुल्क वृद्धि के लिये शासन के अनुमोदन की आवश्यकता नहीं है।
छात्राओं से छेड़छाड़ के प्रकरण
[स्कूल शिक्षा]
60. ( क्र. 6022 ) श्री यशपाल सिंह सिसौदिया : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मंदसौर जिले में 1 जनवरी 2018 के पश्चात विभाग में छात्राओं से अश्लील हरकतें व छेड़छाड़ की रिपोर्ट पर कितने प्रकरण कहां-कहां किस-किस शिक्षक विद्यार्थी या अन्य के खिलाफ दर्ज हुए है तथा गंभीर शिकायतें दर्ज होने पर विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की जाती है? जानकारी देवें। (ख) क्या उक्त प्रकार की घटनाओं कि बढ़ती संख्या पर नियंत्रण करने हेतु दोषी अध्यापक को नौकरी से बर्खास्त करने की सरकार की योजना हैं? यदि हाँ, तो क्या व नहीं तो क्यों? (ग) प्रश्नांश (क) संदर्भित उक्त अवधि में कितने शिक्षकों को नौकरी से निकाला इनमें किस-किस प्रकार के कितने शिक्षक थे? कितनों के प्रकरण पुलिस में दर्ज कराये गये? कितने प्रकरण में मा.न्यायालय में उक्त अपराधियों को सजा हुई कितनों को न्यायालय द्वारा बरी किया गया? क्या बरी किये गये को पुन: सेवा में लिया गया है? यदि हाँ, तो कितने शिक्षकों को कहाँ-कहाँ लिया गया? समस्त कार्यवाही की नाम पद सहित जानकारी देवें। (घ) क्या मंदसौर जिले में शासन के नियमानुसार समस्त हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में कम से कम एक शिक्षिका की नियुक्ति अनिवार्य है जहाँ बालिकाएं अध्यनरत हैं? यदि हाँ, तो मंदसौर जिले के कितने हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में कम से कम एक शिक्षिका है, कितनों में नहीं?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) मंदसौर जिले में 01 जनवरी 2018 के पश्चात 01 प्रकरण श्री सुरेश कुमार बोरोना, शिक्षक क.मा.वि. सीतामऊ के विरूद्ध दर्ज हुआ। संबधित को जिला कार्यालय के आ.क्र. 5154 दिनांक 01-10-2018 से संबंधित को निंलबित किया गया। गंभीर शिकायतों पर विभाग द्वारा नियमानुसार कार्यवाही की जाती है। (ख) दोषियों के विरूद्ध नियमानुसार दंण्डात्मक कार्यवाही की जाती है। प्रचलित नियमों के तहत कार्यवाही होने के कारण शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (ग) जिले में 01 प्रकरण दर्ज किया गया था। जिसमें शिक्षक को न्यायालय द्वारा बरी किया गया है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (घ) प्रत्येक विद्यालय में महिला शिक्षका की अनिवार्यता नहीं है। मंदसौर जिले में 69 हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में कम से कम 01 शिक्षिका कार्यरत है, 13 हायर सेकेण्डरी विद्यालयों में महिला शिक्षिका नहीं है।
अनुकम्पा नियुक्ति दिया जाना
[स्कूल शिक्षा]
61. ( क्र. 6044 ) श्री शरद जुगलाल कोल : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) स्व. श्रीमती उमा द्विवेदी के संबंध में गलत जानकारी जिला शिक्षा अधिकारी रीवा द्वारा भेजकर श्रीमती द्विवेदी के आदेशों को अनुकम्पा नियुक्ति से वंचित रखा गया क्यों? इस पर क्या सहानुभूति पूर्वक विचार कर विशेष प्रकरण मानकर अनुकम्पा नियुक्ति बाबत् अनुमति प्रदान करेगे तो कब तक? (ख) श्रीमती विमला द्विवेदी के पति श्री बालकृष्ण द्विवेदी शिक्षाकर्मी वर्ग 2 के पद पर रहते हुये मृत्यु हो गई थी तथा क्या उन्हें मानवीय आधार पर अनुकंपा नियुक्ति की गई? (ग) क्या इसी तरह उमा द्विवेदी के वारिसानों को अनुकम्पा नियुक्ति के लाभ विशेष प्रकरण मानकर देंगे जबकि इस समय अनुकम्पा नियुक्ति बाबत् माननीय द्वारा सरलीकरण किया गया है?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी नहीं। अपितु स्व. श्रीमती उमा द्विवेदी के पति श्री विद्याधर द्विवेदी की नियुक्ति वर्ष 1998 में शिक्षाकर्मी वर्ग-3 प्रा.शा. उमरिहा में की गई थी, जो वर्तमान में प्राथमिक शिक्षक के पद पर प्रा.शा. उमरिहा में ही कार्यरत है। जिनकी यूनिक आईडी-AX5556 है। जिस कारण अनुकंपा नियुक्ति हेतु अन्य आश्रितों को शासन द्वारा दिये गये निर्देश के अनुक्रम में नियमानुसार अनुकंपा नियुक्ति की पात्रता नहीं है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी हाँ। श्रीमती विमला द्विवेदी के पति स्व. श्री बालकृष्ण द्विवेदी शिक्षाकर्मी वर्ग-2 के पद पर शास. हाईस्कूल फूल नईगढ़ी रीवा में पदस्थ थे। जिनकी बस दुर्घटना में दिनांक 27.07.2002 को मृत्यु हो जाने के उपरान्त तत्कालीन मुख्यमंत्री महोदय द्वारा भृत्य के पद पर विशेष नियुक्ति पत्नी श्रीमती विमला द्विवेदी को दी गई है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) प्रचलित नियमों के अनुसार दिवंगत कर्मचारी के परिवार में यदि कोई सदस्य शासकीय सेवा में है तो अनुकंपा नियुक्ति की पात्रता नहीं आती है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
वन विभाग द्वारा सामाजिक वानिकी अंतर्गत कराये गये कार्य
[वन]
62. ( क्र. 6051 ) श्री बैजनाथ कुशवाह : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश वन विभाग द्वारा सामाजिक वानिकी के क्या-क्या कार्य कराये जाकर उनके उद्देश्य क्या-क्या हैं व उनके क्रियान्वयन की क्या प्रक्रिया है? (ख) वनमण्डल मुरैना की उपवनखण्ड सबलगढ़ में वर्ष 2017 से 2021 तक क्या-क्या कार्य कराये गये कार्य का नाम, विवरण, व्यय राशि, वर्ष, दिनांक, क्रियान्वयन एजेंसी का नाम पता, मांग संख्या, लेखा शीर्ष, आदि सहित बतावें। (ग) प्रश्नांश (ख) में उल्लेखित कार्यों की वर्तमान स्थिति क्या है?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) वन विभाग द्वारा सामाजिक वानिकी के अंतर्गत विभागीय रोपणों एवं गैर वन क्षेत्रों में रोपण हेतु उचित गुणवत्ता के पौधों की तैयारी का कार्य किया जाता है। सामाजिक वानिकी का उद्देश्य मध्यप्रदेश के वनों की उत्पादकता बढ़ानें एवं वन क्षेत्रों तथा वन क्षेत्र के बाहर सामुदायिक एवं निजी भूमि पर वनीकरण हेतु आवश्यक पौधों की पूर्ति करना है। सामाजिक वानिकी के क्रियान्वयन हेतु प्रदेश में 11 सामाजिक वानिकी वन वृत्त संचालित है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ग) उत्तरांश (ख) में कराये गये कार्य की वर्तमान स्थिति संलग्न परिशिष्ट में है।
प्रदेश में गौशालाओं का संचालन
[पशुपालन एवं डेयरी]
63. ( क्र. 6052 ) श्री बैजनाथ कुशवाह : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) तत्कालीन कांग्रेस शासन द्वारा प्रदेश में गौशालायें संचालन हेतु पंचायत स्तर पर गौशाला भवन निर्माण कर संचालन का निर्णय लिया गया था? यदि हाँ, तो गौशालायें संचालन हेतु क्या शासकीय/गैर शासकीय संस्थाओं द्वारा संचालन करने का निर्णय लिया गया था? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में जिला मुरैना में योजना प्रारंभ से प्रश्न दिनांक तक इस हेतु क्या-क्या कार्यवाही हुई? (ग) जिला मुरैना में किन-किन ग्राम पंचायतों में गौशालायें स्वीकृत होकर प्रारंभ हैं? विकासखण्डवार जानकारी दी जावे।
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) तत्कालीन सरकार द्वारा प्रदेश में निराश्रित गौवंश की देख-रेख के लिए प्रथम चरण में 1000 गौशालाओं का निर्माण, चयनित पंचायतों में किए जाने का निर्णय लिया गया था। ग्राम पंचायत गौशाला का निर्माण करने के साथ-साथ उनके संचालन के लिए भी उत्तरदायी होंगे। यदि ग्राम पंचायत चाहे तो गौशाला के संचालन हेतु महिला स्व-सहायता समूह अथवा स्वयं सेवी संस्था से अनुबंध कर सकती है। (ख) मुरैना जिल में योजना प्रारंभ से मुख्यमंत्री गौसेवा योजना अंतर्गत 14 गौशालाएं पंचायतों द्वारा संचालित की जा रही है तथा 14 गौशालाओं स्व-सहायता समूह द्वारा संचालित की जा रही है। (ग) ग्राम पंचायतों में स्वीकृत एवं प्रारंभ गौशालाओं की विकासखण्डवार जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार।
रोजगार मूलक गतिविधियों के क्रियान्वयन हेतु अनुदान राशि
[जनजातीय कार्य]
64. ( क्र. 6067 ) श्री प्रदीप पटेल : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या जिला संयोजक आदिम जाति एवं अनुसूचित जाति कल्याण विभाग रीवा का आई.डी.बी.आई. बैंक में खाता क्रमांक 0423104000075509, दिनांक 21.12.2013 को खोला गया था? उक्त बैंक के खाता खोलने की तिथि से 31.03.2018 तक किस-किस को किस चेक क्रमांक से कितनी-कितनी राशि का भुगतान किया गया? दिनांकवार/माहवार/वर्षवार/भुगतान की गई राशिवार/भुगतान प्राप्तकर्ता के नाम एवं पतेवार/भुगतान प्राप्तकर्ता को किस कारण से भुगतान किस मद से किया गया का प्रकरणवार/कारणवार जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) क्या जिला संयोजक आदिम जाति कल्याण रीवा को क्रमांक/अनु./एस.सी.ए./2013-14/न.क्र. 179/2563, दिनांक 12.08.2013 से 250.05 लाख, क्रमांक/अनु./एस.सी.ए./2013-14/न.क्र. 179/3478, दिनांक 03.10.2013 से 83.35 लाख, क्रमांक/अनु./एस.सी.ए./2014-15/न.क्र. 187/2007, दिनांक 02.08.2014 से 55.25 लाख, क्रमांक/अनु./एस.सी.ए./2014-15/न.क्र. 187/4985, दिनांक 09.12.2014 से 84.51 लाख रूपये प्राप्त हुये? क्या उक्त राशि बिखरे हुये बी.पी.एल. आदिवासियों को रोजगार मूलक गतिविधियों के क्रियान्वयन हेतु अनुदान की राशि सीधे उनके बैंक खाते में दी जाती थी? (ग) राज्य शासन कब तक नियमों के विपरीत प्रश्नांश (क) में उल्लेखित काटे गये चेक/भुगतान की गई राशि पर किस-किस नाम/पदनाम को चिन्हित कर उनके विरुद्ध वसूली एवं निलंबन आदेश जारी करेगा?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार। (ख) जी हाँ। विभाग द्वारा उपलब्ध कराये गये आवंटन से राशि का आहरण कर आदिवासी उपयोजना क्षेत्र के बाहर बिखरे हुये बी.पी.एल. आदिवासियों को रोजगार मूलक गतिविधियों के प्रशिक्षण हेतु एन.जी.ओ. के बैंक खातों में राशि स्थानांतरित की गई। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार।
संरक्षित वन आदेशित भूमियों से संबंधित कार्यवाही
[वन]
65. ( क्र. 6104 ) श्री नारायण त्रिपाठी : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राजस्व अभिलेखों में बड़े झाड़, छोटे झाड़ के जंगल, पहाड़ चट्टान घास, चरनोई मद में दर्ज रीवा राज दरबार के आदेश दिनांक 6-8 फरवरी, 1937 से संरक्षित वन आदेशित भूमियों से संबंधित कार्यवाही प्रश्नांकित दिनांक तक भी पूरी नहीं की गई? (ख) यदि हाँ, तो किस जिले की किस मद में दर्ज जमीनों को 1937 के आदेश से संरक्षित वन आदेशित किया गया? उन जमीनों से संबंधित कौन-कौन सी कार्यवाही वर्तमान में किन कारणों से लंबित है? (ग) लंबित कार्यवाहियों को पूरा किए जाने के संबंध में शासन क्या कार्यवाही कर रहा है? कब तक करेगा?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) जी नहीं। (ख) एवं (ग) (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
संरक्षित आदेशित भूमियों के लंबित प्रकरण
[वन]
66. ( क्र. 6105 ) श्री नारायण त्रिपाठी : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) के द्वारा रीवा राज दरबार के आदेश दिनांक 6-8 फरवरी, 1937 से संरक्षित आदेशित भूमियों की भा.व.अ. 1927 की धारा 5 से 19 तक की जाँच प्रश्नांकित दिनांक तक भी पूरी नहीं की जा सकी है? (ख) यदि हाँ, तो कितनी भूमियों की धारा 5 से 19 तक की जाँच वर्तमान में किन कारणों से लंबित है? (ग) धारा 5 से 19 तक की जाँच के लिए लंबित भूमि राजस्व विभाग के कौन से मानचित्र में दर्ज है। (घ) धारा 5 से 19 तक की जाँच कब तक पूरी की जावेगी।
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) से (घ) जानकारी संकलित की जा रही है।
निजी चिकित्सा महाविद्यालय की फीस वृद्धि
[चिकित्सा शिक्षा]
67. ( क्र. 6122 ) श्री हर्ष विजय गेहलोत : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मान. मंत्री से AFRC ने निजी चिकित्सा महाविद्यालय की फीस 2014-15 में 3.75 लाख से बढ़ाकर 2019-20 में 12.75 लाख करने हेतु अनुमोदन प्राप्त किया? क्या इस अवधि में प्रतिवर्ष फीस वृद्धि करने के कारणों से माननीय मंत्री जी को अवगत कराया? यदि हाँ, तो संबंधित कांगजात की प्रति देवें। (ख) प्रश्नांश (क) यदि नहीं, तो बतावें कि विभागीय मंत्री का अनुमोदन प्राप्त नहीं करना कारणों से अवगत नहीं कराना किस नियम से उचित है? AFRC के एक्ट में कहीं ऐसा नहीं लिखा है? क्या AFRC द्वारा सामान्य प्रशासनिक प्रक्रिया का पालन नहीं किया जाता है? विभाग ने कभी इस बारे में कोई कार्यवाही की? (ग) क्या विभाग द्वारा माननीय मंत्री जी के यह संज्ञान में लाया गया कि निजी चिकित्सा महाविद्यालय द्वारा PMT 2011 तथा 2012 में भर्ती में फर्जीवाड़े को लेकर CBI ने मालिकों पर प्रकरण दर्ज किया है तथा जिन चयनित अभ्यर्थी पर प्रकरण दर्ज हुआ, उन्हें निजी चिकित्सा महाविद्यालय से निष्कासित नहीं किया है? यदि नहीं, तो कारण बतावें। (घ) क्या चिकित्सा शिक्षा संचालनालय निजी चिकित्सा महाविद्यालय में PMT के माध्यम से शेष वर्षों की भर्ती की प्रश्नांश (ग) के सन्दर्भ में कार्यवाही हेतु माननीय मंत्री जी की राय/टिप्पणी प्राप्त की है? यदि नहीं, तो क्यों?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जी नहीं। (ख) फीस निर्धारण हेतु मध्यप्रदेश निजी व्यावसायिक शिक्षण संस्था (प्रवेश का विनियामन एवं शुल्क का निर्धारण) अधिनियम 2007 के अध्याय-2 में निहित शक्तियों एवं विनियम-2008 की कंडिका-5 में निहित प्रावधान अनुसार शुल्क का विनियमन किया जाता है। निहित प्रावधान अंतर्गत माननीय मंत्री जी को अवगत कराया जाना या अनुमोदन प्राप्त करने का एक्ट में कोई उल्लेख नहीं है। (अधिनियम 2007 एवं विनियमन 2008 पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार। (ग) जानकारी विभाग द्वारा संधारित नहीं की जाती। (घ) प्रश्नांश (ग) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विधानसभा क्षेत्र बैरसिया अंतर्गत हाई स्कूल भवन निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
68. ( क्र. 6136 ) श्री विष्णु खत्री : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा बैरसिया के बागसी, मजीदगढ़, कडैया चंवर एवं रानीखजूरी में हाई स्कूल भवन है अथवा नहीं? (ख) प्रश्नांश (क) यदि नहीं, तो क्या नवीन हाई स्कूल भवन के लिए विभाग की कोई कार्य योजना है?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी नहीं। (ख) नवीन भवन निर्माण बजट की उपलब्धता एवं सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है।
अल्पसंख्यक विभाग में पदस्थ अधिकारियों/कर्मचारियों की जानकारी
[पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण]
69. ( क्र. 6205 ) श्री भूपेन्द्र मरावी : क्या राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला बालाघाट के अ.पि. वर्ग एवं अल्पसंख्यक विभाग में कौन-कौन अधिकारी/कर्मचारी कब-कब, किस-किस दिनांक से पदस्थ हैं? नामवार जानकारी देवें। क्या मध्यप्रदेश लोक सेवा आयोग द्वारा चयनित अभ्यार्थियों को उनके गृह जिलों में पदस्थ किया जाता है? यदि नहीं, तो किस दिनांक से सहायक संचालक श्रीमती अंजना जैलवार को किन नियमों के तहत गृह जिले में पदस्थ किया गया है? नियम की प्रति देवें। (ख) उक्त सहायक संचालक की पदस्थापना दिनांक से किन-किन व्यक्तियों द्वारा अनियमितताओं के संबंध में किस-किस अधिकारी को शिकायतें की गई? नाम सहित जानकारी देवें। उक्त शिकायतों पर विभाग द्वारा प्रश्न दिनांक तक क्या कोई कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों? क्या उक्त सहायक संचालक एवं उनके पति जो की स्कूल शिक्षा विभाग के अंतर्गत अध्यापक के पद पर विकासखण्ड वारासिवनी जिला बालाघाट में पदस्थ हैं, जिनकी वायरल वीडियो दिनांक 13 नवम्बर, 2020 को न्यूज चैनलों एवं समाचार पत्रों में छात्रवृत्ति के नाम पर मांगी गई रिश्वत को दिखाये जाने पर कलेक्टर बालाघाट द्वारा एवं उक्त विभागों द्वारा क्या कोई कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों? यदि हाँ, तो क्या? (ग) क्या कलेक्टर बालाघाट द्वारा जाँच समिति गठित कर 10 दिवस के भीतर नियुक्त किये गये अधिकारियों से अभिमत मांगा गया था? यदि हाँ, तो उक्त समितियों द्वारा किस दिनांक को अभिमत पेश किये गये? छायाप्रति देवें। (घ) क्या मान. राज्यमंत्री आयुष विभाग म.प्र. शासन के द्वारा सहायक संचालक के खिलाफ जाँच के आदेश दिये गये थे? यदि हाँ, तो उक्त आदेश पर विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों? उक्त सहायक संचालक के खिलाफ विभाग क्या कार्यवाही करेगा और कब तक?
राज्यमंत्री, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण ( श्री रामखेलावन पटेल ) : (क) पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक कल्याण विभाग अंतर्गत जिला-बालाघाट में पदस्थ अधिकारी/कर्मचारियों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। सामान्यत: नहीं किया जाता। स्थानांतरण नीति वर्ष 2017-18 में इस संबंध में स्पष्ट उल्लेख नहीं है। श्रीमती अंजना जैतवार को दिनांक 16.07.2017 से स्वयं के व्यय पर स्थानांतरण नीति वर्ष 2017-18 की कंडिका-2 प्रशासनिक आवश्यकता अनुसार निम्नलिखित आधार पर पदस्थ किया गया है। (8.6) इसमें उल्लेख है कि रिक्त पदों की पूर्ति विभाग स्वविवेक से निर्णय लेकर कर सकता है। (8.11) पति-पत्नि की एक ही स्थान पर पदस्थापना संबंधी प्रावधान। (8.14) 40 प्रतिशत से अधिक नि:शक्तता के आधार पर स्वयं के व्यय पर स्वेच्छा से स्थानांतरण किये जा सकते हैं। नियम की प्रति की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। (ख) सहायक संचालक के विरूद्ध छात्रवृत्ति प्रकरण के संबंध में श्री प्रफुल्ल चित्रीव द्वारा कलेक्टर बालाघाट, आयुक्त तथा सचिव, पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक कल्याण विभाग को शिकायत की गयी। विभाग द्वारा कलेक्टर से जाँच करायी गयी। जाँच में दोषी नहीं पाया। जाँच में शिकायत प्रमाणित नहीं पायी गयी। जाँच प्रतिवेदन जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है। (ग) जी हाँ। दिनांक 02.03.2021 को। छायाप्रति जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-द अनुसार है। (घ) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
कैंसर के मरीजों हेतु मशीनों का क्रय
[चिकित्सा शिक्षा]
70. ( क्र. 6232 ) श्री कुणाल चौधरी : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या यह सही है कि हमीदिया चिकित्सा महाविद्यालय भोपाल में गामा केमरा मेमोग्राफी मशीन कोबाल्ट मशीन ब्रेक्री थेरेपी मशीन क्रय की गई है? यदि हाँ, तो उनका मूल्य विक्रेता का नाम, पता मशीन प्राप्ति की दिनांक सहित सूची देवें तथा बतावें की इनकी स्थापना के बाद यह किस-किस दिनांक से चालू हुई तथा इनकी अद्यतन स्थिति क्या है? (ख) क्या यह सही है कि गामा केमरा के टेण्डर की शर्तों के अनुसार एक चिकित्सक एवं दो टेक्नीशियन को प्रशिक्षण के लिये विदेश भेजना था? यदि हाँ, तो किस-किस दिनांक को भेजा गया तथा वर्तमान में वे गामा कैमरे का संचालन कर रहे हैं या अन्य कोई कार्य कर रहे हैं? (ग) क्या यह सही है कि हमीदिया अस्पताल में खण्ड (क) के 4 मशीनों के अतिरिक्त कई महंगी मशीनें बंद पड़ी हैं? दिनांक 25 फरवरी, 2021 की स्थिति में बतावें की 5 लाख से अधिक मूल्य वाले कौन-कौन सी मशीन किस दिनांक से किस कारण से बंद पड़ी है तथा उनके बंद होने से गंभीर बीमारी के मरीजों को हित लाभ नहीं मिल रहा है? (घ) कैंसर के मरीजों के लिये उपयोग में आने वाली कौन-कौन सी मशीनें बंद हैं तथा उससे मरीजों को किस-किस प्रकार के इलाज अथवा जाँच से वंचित होना पड़ रहा है तथा उस इलाज के अभाव में उनकी मृत्यु हो सकती है? यदि हाँ, तो बतावें कि विगत एक वर्ष में कैंसर की बीमारी से उपचार प्राप्त करने वाले कितने मरीजों की मृत्यु हुई?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) जी हाँ। शेष प्रश्नांश की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) जी नहीं। टेंडर आदेश की छायाप्रति संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। एक चिकित्सक को दिनांक 12/01/2016 से 24/02/2016 तक विदेश (अटलान्टा, यू.एस.ए.) में ट्रेनिंग हेतु भेजा गया था। उनके द्वारा स्वेच्छा सेवानिवृत्ति ली गई है। (ग) जी नहीं। दिनांक 25 फरवरी, 2021 की स्थिति में 5 लाख से अधिक मूल्य की मशीनें बंद नहीं है। मशीनों से मरीजों का इलाज हो रहा है। (घ) कैंसर के मरीजों के लिए उपयोग में आने वाली मशीनें क्रियाशील है। सामान्यत: मशीनें किसी भी तकनीकी कारण सुचारू रूप से कार्य न करने पर उनका आवश्यक सुधार कार्य करवा लिया जाता है। अत: किसी भी मरीज को इलाज अथवा जाँच से वंचित नहीं होना पड़ रहा है। अत: इलाज के अभाव में मृत्यु का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। इलाज के अभाव में विगत एक वर्ष में कैंसर की बीमारी से उपचार प्राप्त करने वाले किसी भी रोगी की मृत्यु नहीं हुई है।
राज्य शिक्षा केन्द्र में प्रतिनियुक्ति समाप्त की जाना
[स्कूल शिक्षा]
71. ( क्र. 6239 ) श्री राम दांगोरे : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) आयुक्त राज्य शिक्षा केन्द्र भोपाल में कितने पद स्वीकृत हैं और कितने लोग प्रतिनियुक्ति पर हैं? प्रतिनियुक्ति अवधि पूर्ण होने पर भी आज दिनांक तक कितने लोग पदस्थ हैं? इन्हें कब हटाया जायेगा तथा नवीन योग्यताधारियों को प्रतिनियुक्ति पर अवसर कब दिया जावेगा? (ख) आयुक्त राज्य शिक्षा केन्द्र अंतर्गत समस्त शिक्षा महाविद्यालय एवं डाईट में कितने पद स्वीकृत एवं रिक्त हैं? शिक्षा महाविद्यालय एवं डाईट में कितने लोग प्रतिनियुक्ति पर हैं? प्रतिनियुक्ति समाप्त होने के बाद उन्हें कब हटाया जावेगा? (ग) कितने नियम विरूद्ध डाईट केडर के व्यक्ति शासकीय शिक्षा महाविद्यालय में पदस्थ हैं? उन्हें वापस डाईट केडर में कब भेजा जायेगा? क्या शासकीय शिक्षा महाविद्यालय में प्रतिनियुक्ति पर पदस्थ कर्मचारियों की प्रतिनियुक्ति अवधि समाप्त हुई है तो क्या प्रतिनियुक्ति अवधि बढ़ाने हेतु कार्यवाही की गई? यदि प्रतिनियुक्ति बढ़ाई गई है तो कितने कर्मचारियों की प्रतिनियुक्ति बढ़ाई गई? सूची संलग्न करें। (घ) यदि प्रतिनियुक्ति अवधि नहीं बढ़ाई गई तो क्या प्रतिनियुक्ति समाप्त होने के बाद कितने कर्मचारियों को मूल विभाग में वापसी किया गया? सूची संलग्न करें। यदि मूल विभाग में वापसी नहीं की गयी तो क्यों नहीं की गयी और कब तक वापसी की जावेगी?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) आयुक्त राज्य शिक्षा केन्द्र अंतर्गत एस.सी.ई.आर.टी. इकाई में 43 अकादमिक पद स्वीकृत है एवं 06 अकादमिक सदस्य प्रतिनियुक्ति पर है। अकादमिक सदस्यों की कमी एवं सामान्य प्रशासन विभाग के ज्ञाप क्र.सी-3-18/94/3/1 दिनांक 12 दिसंबर 1994 एवं लोकशिक्षण संचालनालय के पत्र क्र.स्था-1राज/जी/194/प्रतिनि.2017/ 798 दिनांक 09.06.2017 के तहत सेवाएं निरंतर रखे जाने के निर्देशों के तहत हटाए जाने का प्रश्न नहीं है। राज्य शिक्षा केन्द्र की समग्र शिक्षा अभियान मिशन इकाई परियोजना में स्वीकृत पद की जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। समग्र शिक्षा अभियान मिशन इकाई में 13 अधिकारी प्रतिनियुक्ति पर कार्यरत है, जिसमें से स्कूल शिक्षा विभाग के 07 अधिकारी/कर्मचारी तथा वित्त विभाग के 01 अधिकारी की प्रतिनियुक्ति अवधि चार वर्ष से अधिक हो चुकी है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है। सामान्य प्रशासन विभाग के पत्र क्रमांक सी-18/94/3/1 दिनांक 12.12.1994 में प्रतिनियुक्ति अवधि सामान्यतः चार वर्ष। इससे अधिक अवधि तक रखा जाना आवश्यक है तो दोनों विभागों की आपसी सहमति से अवधि बढ़ाई जा सकती है। लोक शिक्षण संचालनालय के पत्र क्रमांक/स्था.1/राज/जी/194/प्रति .नि./2017/798 दिनां 9.6.2017 के माध्यम से स्कूल शिक्षा विभाग के अंतर्गत कार्यालय तथा उसके अनुशांगिक कार्यालयों में पदस्थ ऐसे शिक्षक सवंर्ग के कार्यरत कर्मचारियों को भारमुक्त न किये जाने के निर्देश हैं। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) राज्य शिक्षा केन्द्र की एस.सी.ई.आर.टी इकाई के अधीनस्थ शिक्षा महाविद्यालय में 147 पद स्वीकृत हैं एवं 83 पद रिक्त एवं डाइट में 792 पद स्वीकृत एवं 394 अकादमिक पद रिक्त हैं। इन संस्थाओं में कुल 40 अकादमिक सदस्य प्रतिनियुक्ति पर हैं। सामान्य प्रशासन विभाग के ज्ञाप क्र.सी-3-18/94/3/1 दिनांक 12 दिसंबर 1994 एवं लोक शिक्षण संचालनालय के पत्र क्र.स्था-1राज/जी/194/प्रतिनि.2017/798 दिनांक 09.06.2017 के तहत सेवाएं निरंतर रखे जाने के निर्देशों के तहत हटाए जाने का प्रश्न नहीं है। (ग) शासन निर्देशों के तहत सेवाएं निरंतर रखे जाने के फलस्वरूप वापिस करने का प्रश्न नहीं है। शासनादेश सी-3-18/94/3/1 दिनांक 12 दिसंबर 1994 के तहत बार-बार प्रतिनियुक्ति बढ़ाये जाने की आवश्यकता नहीं है। (घ) भाग 'ग' के उत्तर के प्रकाश में जानकारी निरंक है। शासनादेश के तहत कार्यरत रखे जाने से शेषांश का प्रश्न नहीं है। संचालक द्वारा अनुमोदित।
स्थानांतरण पर प्रतिबंध को शिथिल किया जाना
[स्कूल शिक्षा]
72. ( क्र. 6251 ) श्री शरद जुगलाल कोल : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश शासन स्कूल शिक्षा विभाग मंत्रालय के पत्र दिनांक 15 नवम्बर, 2019 द्वारा विभाग के पत्र दिनांक 22-06-2019 द्वारा जारी स्थानांतरण की नीति वर्ष 2019 की कंडिका 2 की उप कंडिका 2.3 में उल्लेखित संवर्ग के लिए 15-11-2019 से 23-11-2019 तक की अवधि के लिए वर्तमान में लागू स्थानांतरण पर प्रतिबंध को शिथिल किया गया था? (ख) क्या सतना जिले में ऑनलाइन पोर्टल में गलत फीडिंग के कारण 106 शिक्षक स्थानांतरण के बाद भी ज्वाईन नहीं पो पाये थे तथा होल्ड अनहोल्ड के चक्कर में वेतन से वंचित रहे हैं? इनकी सूची विवरण सहित उपलब्ध करायें। (ग) क्या स्थानांतरण में प्रतिबंध शिथिल करने का फायदा उठाते हुए डी.ई.ओ. सतना ने 350 से अधिक स्थानांतरण कर डाले हैं तथा प्रशासन की आड़ लेकर पारस्परिक सहमति और शहर में तथा शहर के नजदीक स्थानांतरण किए गए हैं जहां पद रिक्त नहीं थे? (घ) यदि (क), (ख) और (ग) सही है और प्रकरण में लिपिक को निलंबित किया गया था तो निलंबित लिपिक की विभागीय जाँच का प्रतिवेदन दें और बताएं कि संबंधित डी.ई.ओ. को कब तक निलंबित किया जायेगा व दोषी लिपिक की नियम विरूद्ध विभागीय जाँच पुन: संचालनालय स्तर से कब तक कराई जायेगी? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। संचालनालय द्वारा किये गये ऑनलाइन ट्रांसफर में 209 शिक्षक संवर्ग के कर्मचारियों के पदस्थापना स्थल पर पोर्टल पर रिक्त पद दर्शित न होने के कारण संबंधित संकुल प्राचार्यों द्वारा उन्हें कार्यभार ग्रहण न कराया जाकर होल्ड पर रखा गया था। इनमें से 106 कर्मचारियों को अनहोल्ड कर दिये जाने के कारण तत्समय सितंबर 2019 से दिसंबर 2019 तक का वेतन आहरित नहीं हो सका था। जिला शिक्षा अधिकारी सतना के पत्र दिनांक 16/09/2019, 25/09/2019, 13/12/2019 एवं 16/12/2019 द्वारा निर्देश जारी कर वेतन भुगतान करा दिया गया है। वर्तमान में किसी भी शिक्षक का उक्त अवधि का वेतन आहरण हेतु शेष नहीं है। सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार है। (ग) जी नहीं। जिला शिक्षा अधिकारी सतना ट्रांसफर पॉलिसी वर्ष 2019-2020 के प्रावधान अनुसार जिले के प्रभारी मंत्री के अनुमोदन उपरांत शिक्षक संवर्ग के 258 कर्मचारियों के ऑनलाइन स्थानांतरण रिक्त पदों पर किये गये थे। (घ) ऑनलाइन स्थानांतरण प्रकरणों में जिला शिक्षा अधिकारी सतना के पासवर्ड से बगैर परीक्षण किये अनहोल्ड किये जाने के कारण श्री अमित सिंह, सहायक ग्रेड-3 को निलंबित किया गया था तथा विभागीय जांच उपरांत संयुक्त संचालक, रीवा संभाग रीवा के आदेश दिनांक 29.07.2020 द्वारा उनके विरूद्ध एक वेतनवृद्धि असंचयी प्रभाव से रोके जाने की शास्ति अधिरोपित की गई थी। जांच प्रतिवेदन की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार है। जांच प्रतिवेदन अनुसार दोषी लिपिक के विरूद्ध कार्यवाही की जा चुकी है, अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पंधाना विकासखण्ड को जनजातीय विकासखण्ड का दर्जा
[जनजातीय कार्य]
73. ( क्र. 6267 ) श्री राम दांगोरे : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) पंधाना विधानसभा क्षेत्र में जनजातीय जनसंख्या कितनी है? इस वर्ग की सुविधाओं और विकास हेतु क्या कदम उठाये गये हैं? (ख) क्या पंधाना विकासखण्ड को जनजातीय विकासखण्ड को दर्जा दिया जाना चाहिये? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों नहीं? (ग) क्या पंधाना स्थित नवीन शासकीय महाविद्यालय का नाम शहीद जननायक टंटया भील शासकीय महाविद्यालय करेंगे?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) पंधाना विधानसभा क्षेत्र में अनुसूचित जनजाति की जनसंख्या 154072 है। इस वर्ग की सुविधा एवं विकास हेतु विधानसभा पंधाना के 34 जनजाति बाहुल्य ग्राम एकीकृत आदिवासी विकास परियोजना खण्डवा एवं 05 ग्राम मॉडा पॉकेट पिपलकोटा में शामिल है। (ख) एवं (ग) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
प्राचार्य के विरूद्ध अनियमितताओं की शिकायतें
[स्कूल शिक्षा]
74. ( क्र. 6271 ) डॉ. सतीश सिकरवार : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) टीकमगढ़ जिले के शा.उ.मा.वि. दिगौड़ा के प्रभारी प्राचार्य/व्याख्याता के विरूद्ध अनियमितताओं की शिकायतें प्राप्त हुई हैं? यदि हाँ, तो क्या? (ख) प्रश्न दिनांक तक शिकायतों के विरूद्ध विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई? की गई कार्यवाही से अवगत करायें। यदि नहीं, तो कारण बतायें। क्या गंभीर अनियमितताएं नहीं हुई हैं? पूर्ण विवरण दें। (ग) जिनके विरूद्ध शिकायतें की गई, उनकी पदस्थापना वर्तमान में कहाँ है?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। असंगठित श्रमिकों (संबल योजना) के बच्चों/छात्रों से जानबूझकर जबरन संपूर्ण बोर्ड परीक्षा शुल्क वसूल करना, कक्षा 9वीं से 12वीं तक के छात्रों के लिये परीक्षा शुल्क 100 रूपये के स्थान पर 200 रूपये वसूल करना, शाला विकास शुल्क निर्धारित करने में नियमानुसार प्रक्रिया का पालन नहीं करना, संस्था के विभिन्न खातों से 8-10 लाख रूपयों की राशि निकालना एवं व्हाउचर उपलब्ध नहीं होना इत्यादि शिकायतें प्राप्त हुई। (ख) शिकायतों की जाँच कराई गई। निराधार पाई जाने से शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) शा.उ.मा.वि. दिगौड़ा में।
अनुदानित मदरसों में कार्यरत शिक्षक/शिक्षिकाओं को वेतन का भुगतान
[स्कूल शिक्षा]
75. ( क्र. 6273 ) श्री बृजेन्द्र सिंह राठौर : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मध्यप्रदेश मदरसा बोर्ड से मान्यता प्राप्त व भारत सरकार से अनुदान प्राप्त प्रदेश के 1824 मदरसों में कार्यरत शिक्षक-शिक्षिकाओं को विगत