मध्यप्रदेश विधान सभा
प्रश्नोत्तर-सूची
फरवरी-मार्च, 2021 सत्र
बुधवार, दिनांक 17 मार्च, 2021
भाग-1
तारांकित
प्रश्नोत्तर
डेयरी
विकास/बैक्यार्ड
पोल्ट्री
फार्म योजना का
क्रियान्वयन
[पशुपालन एवं डेयरी]
1. ( *क्र. 317 ) श्री संजय उइके : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जनजातीय कार्य विभाग द्वारा विभाग को आदिवासी हितग्राहियों हेतु डेयरी विकास परियोजना एवं बैक्यार्ड पोल्ट्री फार्म योजना अंतर्गत राशि प्राप्त हुई है? यदि हाँ, तो वित्तीय वर्ष 2014-15 से प्रश्न दिनांक तक किस-किस योजना में कितनी-कितनी राशि कब-कब प्राप्त हुई, कब कितनी राशि समर्पित की गई, कब कितनी राशि पुनरावंटन में प्राप्त हुई? (ख) डेयरी विकास परियोजना में किन-किन जिलों में कितनी राशि कब आवंटित की गई? आवंटन के विरूद्ध कौन-कौन सी सामग्री/उपकरण कितनी-कितनी राशि के कब खरीदे गए, योजनानुसार कितनी समितियों का गठन किया गया एवं कितनी समितियों का नहीं किया गया? योजनानुसार प्रत्येक समिति को कितनी मात्रा का दुग्ध एकत्रीकरण/उत्पादन किया जाना था, उसके विरूद्ध कितना किया गया, समिति द्वारा प्रति माह कितनी राशि का दुग्ध एकत्रीकरण/उत्पादन किया गया? (ग) बैक्यार्ड पोल्ट्री फार्म योजना में किन-किन जिलों में कितनी राशि किन कार्यों/प्रशिक्षण/खरीदी में व्यय की गयी? योजनावार समिति/हितग्राहियों के खातों में कितनी राशि कब डाली गई एवं कितनी राशि शेष है, योजनानुसार प्रश्न दिनांक तक कितना कार्य पूर्ण हो चुका है? व्यय की जानकारी देवें।
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी हाँ। वर्षवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) जनजातीय कार्य विभाग द्वारा महिला आदिवासी हितग्राहियों के लिए महिला आदिवासी डेयरी विकास परियोजना प्रदेश के 06 जिलों में क्रियान्वयन हेतु वर्ष 2015-16 में स्वीकृत की गई। परियोजना हेतु विमुक्त राशि रू. 3747.28 में से कुल राशि रू. 3722.28 लाख का उपयोग किया गया। शेष राशि रू. 25.00 लाख को पुनर्विनियोजन कर जिला जबलपुर में ई.टी.पी. संयंत्र की स्थापना हेतु जबलपुर दुग्ध महासंघ को प्रदाय की जाएगी तथा वर्ष 2017-18 में प्राप्त राशि रू. 707.70 लाख जो के-डिपोजिट में जमा है, आहरण करने की कार्यवाही प्रचलन में है। योजना का क्रियान्वयन धार, झाबुआ, छिंदवाड़ा, बालाघाट, सिवनी, जिलों में किया गया, जिसमें प्रथम 02 वर्ष के लिए निर्धारित 240 दुग्ध समिति गठन का लक्ष्य था, जो शत-प्रतिशत प्राप्त किया गया। जिलेवार आवंटित राशि का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। जिलेवार आवंटित राशि से खरीदी गई सामग्री/उपकरण का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। परियोजना के तहत जिलेवार प्रत्येक समिति के प्रत्येक सदस्य से प्रतिदिन 03 लीटर के दूध संकलन/एकत्रीकरण लक्ष्य के विरूद्ध किये गये संकलित/एकत्रित दूध तथा दुग्ध उत्पादों के लिये भुगतान की गई राशि की वर्षवार जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''द'' अनुसार है। (ग) बैक्यार्ड पोल्ट्री फार्म योजना की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ई'' अनुसार है।
वन सम्पत्ति के नुकसान पर कार्यवाही
[वन]
2. ( *क्र. 4536 ) श्री लाखन सिंह यादव : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दिनांक 01 जनवरी, 2019 से प्रश्न दिनांक तक ग्वालियर जिले में वन विभाग द्वारा वन सम्पदा को क्षतिग्रस्त, चोरी करने, नुकसान करने, अवैध उत्खनन करने, वन भूमि पर अवैध अतिक्रमण करने या वन सम्पदा को नष्ट करने बाबत् किन-किन व्यक्तियों पर किस-किस प्रकार का अवैध कार्य वन सम्पदा को नुकसान करने पर वन विभाग द्वारा किस एक्ट में कब-कब क्या कार्यवाही की गई है? नाम, पतावार जानकारी देवें। क्या कोई वाहन जप्त किये गये हैं? यदि हाँ, तो कौन-कौन प्रकार के किस-किस नम्बर के वाहन किस-किस नाम के व्यक्ति के किस-किस स्थान से किस-किस दिनांक को किस-किस जुर्म में जप्त किये गये हैं? जप्त दिनांक से प्रश्न दिनांक तक उन पर क्या-क्या कार्यवाही की गई है? (ख) दिनांक 01 फरवरी, 2021 की स्थिति में वन विभाग की भूमि पर किस-किस पंचायत में या नगरीय निकाय के किस-किस वार्ड नं. में किस-किस खसरा नम्बर में कितने-कितने रकबा पर किन-किन व्यक्तियों द्वारा कब से अवैध अतिक्रमण किया गया है? उनके नाम, ग्राम, ग्राम पंचायत की जानकारी दें। क्या अवैध कब्जा हटाने के लिये वन विभाग द्वारा उनके विरूद्ध कोई कार्यवाही की गई है? यदि हाँ, तो किस-किस व्यक्ति के विरूद्ध क्या-क्या कार्यवाही की गई है?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है।
दुग्ध एकत्रीकरण हेतु नियत भवन का उपयोग
[पशुपालन एवं डेयरी]
3. ( *क्र. 1563 ) श्री संजीव सिंह : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भिण्ड जिले के ग्राम पंचायत सगरा/नयागांव में दूध एकत्रीकरण हेतु भवन/बिल्डिंग बनी हुई है? यदि हाँ, तो वहां पर कौन-कौन कर्मचारी पदस्थ हैं? प्रतिदिन कितना दूध एकत्रित किया जाता है? (ख) यदि नहीं, तो उक्त कार्य अभी तक प्रारंभ क्यों नहीं किया गया? इसके लिए कौन उत्तरदायी या दोषी हैं? उस पर क्या कार्यवाही की गई?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) स्थानीय स्तर से प्राप्त जानकारी अनुसार ग्राम पंचायत सगरा/नयागांव के ग्राम नयागांव में एक भवन वर्ष 1985 में निर्मित किया गया था, जिसे दुग्ध समिति के उपयोग हेतु तत्समय घोषित किया गया था। किन्तु भवन का आधिपत्य दुग्ध समिति को अद्यतन सौंपा नहीं गया है। अद्यतन स्थिति में दुग्ध समिति में दुग्ध संकलित नहीं किया जा रहा है। (ख) ग्राम पंचायत सगरा/नयागांव के ग्राम नयागांव में दुग्ध समिति जनवरी 2021 तक निजी भवन में संचालित रही। दुग्ध संकलन मार्ग पर दुग्ध संकलन कम होने से परिवहन व्यय अधिक आने के कारण नयागांव दुग्ध समिति से वर्तमान में दुग्ध संकलित नहीं किया जा रहा है। शेष असंबद्ध।
सहायक सचिवों के प्रभार में अनियमितता
[स्कूल शिक्षा]
4. ( *क्र. 4069 ) श्री जयसिंह मरावी : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मा.शि.मं. द्वारा आदेश क्र. 3383, भोपाल दिनांक 17.06.2020 एवं आदेश क्र. 3385 भोपाल दिनांक 17.06.2020 के द्वारा सहायक सचिवों को वरिष्ठता का स्पष्ट उल्लंघन करके पंजीयक का प्रभाव भ्रष्टाचार एवं आपसी सांठ-गांठ करके प्रदान किया गया है, जबकि मीना भौरिया को उप-प्राचार्य के प्रभार प्रदान करने हेतु मुख्यमंत्री कार्यालय तथा शिक्षा मंत्री के पत्रों की निरंतर अनदेखी करते हुए दोहरा मापदण्ड अपनाने के दोषियों के विरूद्ध कब तक कार्यवाही अध्यक्ष मा.शि.मं. द्वारा की जायेगी? (ख) श्री उमेश कुमार ठाकुर का जाति प्रमाण पत्र का विभागीय सत्यापन नहीं होने पर मा.शि.मं. द्वारा राज्य स्तरीय छानबीन समिति को इनका प्रकरण जाँच हेतु क्यों नहीं सौंपा गया? जाँच हेतु प्रकरण छानबीन समिति को कब तक सौंपा जायेगा? (ग) सचिव, मा.शि.मं. के पत्र क्र. 4412, दिनांक 16.12.2020 को की गई नियुक्ति में डाटा एन्ट्री ऑपरेटरों की योग्यता निर्धारित मापदण्डों के अनुरूप नहीं होने पर कैसे नियुक्ति प्रदान की गई? 10 डाटा एन्ट्री ऑपरेटरों की नियुक्ति पक्षपातपूर्ण होने पर तथा योग्यतापूर्ण नहीं होने पर शिकायत-पत्र की निष्पक्ष जाँच करवाकर दोषियों के विरूद्ध अध्यक्ष मा.शि.मं. द्वारा कार्यवाही की जाएगी? (घ) यदि हाँ, तो कब, तक नहीं तो क्यों नहीं?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी नहीं, आदेश क्रमांक 3383, भोपाल दिनांक 17.06.2020 एवं आदेश क्रमांक 3385, भोपाल दिनांक 17.06.2020 द्वारा प्रशासनिक कार्य सुविधा की दृष्टि से आगामी आदेश तक सहायक सचिवों को पंजीयक का प्रभार प्रदान किया गया है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-अ अनुसार है। मीना भौरिया को उप प्राचार्य का प्रभार प्रदान करने हेतु मुख्यमंत्री कार्यालय तथा शिक्षा मंत्री के पत्रों की अनदेखी नहीं की गई। उनसे प्राप्त पत्रों के प्रतिउत्तर प्रेषित नहीं किए गए। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) श्री उमेश ठाकुर के जाति प्रमाण-पत्र के संबंध में शिकायत प्राप्त हुई थी, जिसके संदर्भ में कार्यपालिका दण्डाधिकारी संयुक्त कलेक्टर न्यायालय जबलपुर के दिनांक 22.06.2013 पत्र अनुसार श्री उमेश कुमार ठाकुर के जाति प्रमाण-पत्र से संबंधित अभिलेख कार्यालय में उपलब्ध न होने के कारण प्राप्त जाति प्रमाण-पत्र का सत्यापन किया जाना संभव नहीं है। न्यायालय में उपलब्ध कम्प्यूटर में जाति प्रमाण-पत्र की वेब-साईट का अवलोकन किया गया, जिसमें प्रकरण क्रमांक 1653/बी-121/12-13 में दिनांक 09.05.2013 को जाति गौड अनुसूचित जाति का प्रमाण-पत्र जारी होना पाया जाता है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ब अनुसार है। इस कारण राज्य स्तरीय छानबीन समिति में इनका प्रकरण नहीं भेजा गया। शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) आदेश क्रमांक 4412, दिनांक 16.12.2020 द्वारा क्रिप्स के माध्यम से वर्तमान में कार्यरत 30 डाटा एन्ट्री आपरेटरों तथा 10 अन्य डाटा एन्ट्री आपरेटरों को वेतनमान 5200+ ग्रेड पे 2800-8000 के आधार पर मंहगाई भत्ता 154 प्रतिशत किया गया है। उक्त आदेश में आपरेटरों की नई नियुक्तियां नहीं की गईं हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-स अनुसार है। (घ) प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
सतना जिलांतर्गत शालाओं में शौचालयों की स्वीकृति/निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
5. ( *क्र. 5306 ) श्री सिद्धार्थ सुखलाल कुशवाहा : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सतना जिले के जनपद शिक्षा केन्द्र मैहर में सर्वशिक्षा अभियान के तहत शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शालाओं में स्वीकृत एवं निर्मित शौचालय वर्ष 2010-11 से 2017-18 तक कुल 708 कार्य के कार्य समाप्ति एवं राशि उपयोगिता प्रमाण पत्र (सूचना के अधिकार के प्रदत्त जानकारी के अनुसार) जारी किए गए हैं? यदि हाँ, तो शौचालयों के तकनीकी एवं प्रशासनिक स्वीकृति आदेश सहित जिला स्तरीय निर्माण समिति की कार्यवाही विवरण जिसमें उक्त कार्य स्वीकृत किए हैं, उपलब्ध कराएं? (ख) क्या प्रश्नांश (क) अनुसार उल्लेखित वर्षों के बिना स्थल परीक्षण किए बिना डाइस कोड, बिना निर्माण एजेन्सी के हस्ताक्षर के दिसम्बर 2015 में प्रभार में आए जिला शिक्षा केन्द्र के प्रभारी सहायक यंत्री द्वारा बिना तिथि अंकित किए कार्य समाप्ति एवं राशि उपयोगिता प्रमाण पत्र जारी किए गए हैं, जो प्रशासकीय स्वीकृति आदेशों में उल्लेखित शर्तों के विपरीत हैं? (ग) यदि उपरोक्त प्रश्नांश सही है तो संबंधित उपयंत्री एवं सहायक यंत्री के विरुद्ध उक्त अनियमितता के लिए क्या कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। इस दौरान उक्त कार्य हेतु जिला स्तरीय निर्माण समिति की बैठक आयोजित नहीं हुई है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश (ख) के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विकलांग हितग्राहियों को ई-रिक्शा का प्रदाय
[सामाजिक न्याय एवं निःशक्तजन कल्याण]
6. ( *क्र. 5272 ) श्री रविन्द्र सिंह तोमर भिड़ौसा : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सामाजिक न्याय एवं नि:शक्तजन कल्याण विभाग द्वारा जिला मुरैना में कितने विकलांग हितग्राहियों को विगत 5 वर्षों में ई-रिक्शा (बैटरी चलित) प्रदाय किये गये? (ख) ई-रिक्शा प्रदाय करने हेतु शासन की क्या गाइड लाइन है? विकलांगों को विकलांगता का प्रतिशत होने के आधार पर ई-रिक्शा व अन्य उपकरण प्रदाय किये जाते हैं? ई-रिक्शा प्रदाय करने हेतु नियमों को शिथिल कर पैरों से विकलांग व्यक्ति को ई-रिक्शा प्रदाय करने की प्रक्रिया को सुगम बनाने हेतु सरकार द्वारा प्रयास किये जा रहे हैं? अगर हाँ, तो क्या? अगर नहीं तो क्यों?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) ई-रिक्शा (बैटरी चलित) प्रदाय नहीं किये गये हैं। (ख) सामाजिक न्याय एवं नि:शक्तजन कल्याण विभाग द्वारा ई-रिक्शा प्रदाय करने संबंधी योजना संचालित नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी कार्यालयों में आवश्यक संसाधनों की पूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
7. ( *क्र. 2971 ) श्री सुरेन्द्र सिंह नवल सिंह : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में स्कूल शिक्षा विभाग में वर्ष 2016 से संकुल कार्यालयों से वित्तीय प्रभार हटाकर विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी को प्रदान किये गये? यदि हाँ, तो विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी कार्यालयों के आवश्यक संसाधनों की, की गई व्यवस्था, जैसे - भवन, फर्नीचर आदि की सूची प्रदान करें। यदि नहीं, की गई है तो कब तक की जायेगी? (ख) वर्ष 2019 से 2021 तक विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी कार्यालयों को आवश्यक व्यवस्था, जैसे - फर्नीचर, कम्प्यूटर, स्टेशनरी आदि हेतु आकस्मिक निधि हेतु वर्षवार कितनी-कितनी राशि मदवार किन-किन जिलों को आवंटित की गई है? यदि नहीं, की गई है तो क्या कारण है एवं व्यवस्था को सुचारू चलाने हेतु क्या योजना है? (ग) प्रदेश के विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी कार्यालयों को भवन, फर्नीचर आदि की व्यवस्था हेतु क्या योजना बनाई गई है एवं सुविधा कब तक प्रदान की जायेगी?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी कार्यालयों के आवश्यक संसाधनों की व्यवस्था जैसे भवन, फर्नीचर आदि की व्यवस्था स्थानीय स्तर पर की जाती है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''एक एवं दो'' अनुसार है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) प्रश्नाधीन विभागीय विकासखण्ड कार्यालयों हेतु भवन, फर्नीचर आदि की व्यवस्था हेतु सक्षम समिति की स्वीकृति एवं बजट उपलब्धता पर निर्भर है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शिक्षकों को क्रमोन्नति/पदोन्नति
[स्कूल शिक्षा]
8. ( *क्र. 4615 ) श्री संजय शुक्ला : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला इन्दौर अंतर्गत माध्यमिक विद्यालयों व प्राथमिक विद्यालयों में पदस्थ कितने प्राथमिक शिक्षक व माध्यमिक शिक्षकों की 12 वर्ष पश्चात् लगने वाली क्रमोन्नति व पदोन्नति के आदेश प्रश्न दिनांक तक जारी हो चुके हैं? (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में इन्दौर जिला अंतर्गत कितने संकुलों में क्रमोन्नति व पदोन्नति के आदेश जारी हो चुके हैं व कितने संकुलों में आदेश जारी होकर शिक्षकों को पदोन्नति व क्रमोन्नति का लाभ मिल रहा है? (ग) प्रश्नांश (क) व (ख) के संदर्भ में इन्दौर जिला अंतर्गत शेष रहे संकुलों के शिक्षकों को पदोन्नति व क्रमोन्नति का लाभ कब तक दिया जाएगा? (घ) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में शिक्षकों को पदोन्नति व क्रमोन्नति में देरी के क्या कारण हैं? विलंब करने वाले अधिकारी/कर्मचारी पर कोई कार्यवाही की जायेगी?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) नवीन शैक्षणिक संवर्ग के लोक सेवकों को क्रमोन्नति वेतनमान स्वीकृत करने के निर्देश जारी करने की प्रक्रिया प्रचलन में है। कतिपय जिलों द्वारा नवीन शैक्षणिक संवर्ग के लोक सेवकों को बिना शासन स्वीकृति के क्रमोन्नति आदेश जारी कर दिये गये हैं, ऐसे आदेशों के क्रियान्वयन को संचालनालय के पत्र दिनांक 08.03.2021 के द्वारा स्थगित किया गया है। पदोन्नति के संबंध में माननीय उच्चतम न्यायालय द्वारा यथास्थिति के निर्देश हैं। (ख) उत्तरांश (क) अनुसार। (ग) उत्तरांश (क) अनुसार। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं। (घ) उत्तरांश (क) अनुसार। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
प्रदेश के विभिन्न अभ्यारण्यों में टाईगर की गणना
[वन]
9. ( *क्र. 4557 ) श्री यशपाल सिंह सिसौदिया : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्न दिनांक तक प्रदेश में विभिन्न अभयारण्यों में टाइगरों की कुल संख्या कितनी है? प्रदेश में टाइगर की संख्या वृद्धि के लिए गत 5 वर्षों में विभाग ने क्या लक्ष्य रखा? क्या लक्ष्य की पूर्ति समय-सीमा में हो रही है? वर्ष 2020 में "नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया" की रिपोर्ट में प्रदेश के कान्हा किसली, पेंच टाइगर रिजर्व, सतपुड़ा टाइगर रिजर्व के लिए बेहतर प्रबन्धन को लेकर क्या रिपोर्ट दी? (ख) क्या विगत 5 वर्षों में विभिन्न अभयारण्यों में जानवरों द्वारा पर्यटकों व अन्य व्यक्तियों पर हमला किया गया है? यदि हाँ, तो कहां-कहां पर कौन-कौन सी घटनाएं घटित हुईं हैं तथा कहाँ-कहाँ कितने टाइगरों का शिकार किया गया? (ग) क्या कान्हा किसली अभयारण्य में टाईगर के बढ़ते कुनबे के कारण टेरिटोरियल क्षेत्र से टाईगर बाहर निकल रहे हैं? यदि हाँ, तो सरकार द्वारा इन्हें रोकने हेतु क्या योजना बनाई गई है तथा क्या-क्या उपाय किए जा रहे हैं? (घ) मंदसौर के गांधीसागर में कितने बाघ, चीते रजिस्टर्ड हैं? इनकी गणना क्या पद चिन्ह के आधार पर की गयी? इनकी देख-रेख हेतु गांधीसागर में कितना क्षेत्र आरक्षित है? क्या पूरे क्षेत्र में तार फेंसिंग हो गयी है?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) अखिल भारतीय बाघ गणना 2018 के जारी आंकड़ों के अनुसार मध्य प्रदेश में 526 तथा प्रदेश के राष्ट्रीय उद्यानों एवं अभयारण्यों (टाइगर रिजर्व सहित) में बाघों की संख्या 359 पायी गयी है। प्रदेश में टाइगर की संख्या वृद्धि के लिए अपितु कोई लक्ष्य निर्धारित नहीं हैं, परन्तु संख्या में वृद्धि हेतु अथक प्रयास जैसे सुरक्षा, रहवास विकास कार्य आदि कराये गये हैं, जिससे वर्ष 2014 की गणना में पाये गये 308 बाघ की तुलना में वर्ष 2018 की गणना में प्रदेश में 526 बाघ पाये गये हैं। नेशनल टाइगर कंजर्वेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया द्वारा वर्ष 2020 में उक्त टाइगर रिजर्व में बेहतर प्रबंधन के संबंध में पृथक से ऐसी कोई रिपोर्ट नहीं दी गई है। राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण, भारत सरकार द्वारा वर्ष 2018 में देश के समस्त टाइगर रिजर्व के लिये कराये गये मैनेजमेंट इफेक्टिवनेस इवेल्युशन रिपोर्ट जो वर्ष 2019 में प्रकाशित हुई थी, के अनुसार मध्य प्रदेश के तीन टाइगर रिजर्व क्रमशः पेंच, कान्हा एवं सतपुड़ा बेहतर प्रबंधन के लिये देश में प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय स्थान पर हैं। (ख) विगत 5 वर्षों में विभिन्न अभयारण्यों में वन्यप्राणियों द्वारा पर्यटकों पर कोई हमला नहीं किया गया है। विगत 5 वर्षों में प्रदेश में वन्यप्राणियों द्वारा अन्य व्यक्तियों पर किये गये हमले की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 में है। विगत 5 वर्षों में प्रदेश में हुए बाघों के शिकार की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 में है। (ग) संरक्षित क्षेत्र से वन क्षेत्र में बाघों का आना-जाना प्राकृतिक एवं नैसर्गिक प्रक्रिया है। यदा-कदा बाघ वन क्षेत्र से ग्रामीण क्षेत्र में आ जाते हैं जिसे रोकने एवं इनके अनुश्रवण के लिये टाइगर कंजर्वेशन प्लान में आवश्यक प्रावधान किया गया है। इस हेतु राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण, भारत सरकार द्वारा मानक प्रक्रिया निर्धारित है, जिसके अनुसार त्वरित कार्यवाही की जाती है। (घ) मन्दसौर जिले में गांधीसागर अभयारण्य में वन्यप्राणियों के प्रबंधन हेतु 368.620 वर्ग कि.मी. क्षेत्र अधिसूचित है। गांधीसागर स्थित अभयारण्य में वन्यप्राणी गणना के दौरान बाघ एवं चीता की उपस्थिति दर्ज नहीं हुई है। बाघ एवं अन्य मांसाहारी वन्यप्राणियों की गणना एवं आंकलन राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण द्वारा निर्धारित गाइड लाइन्स के अनुसार क्षेत्र में पाये गये प्रत्यक्ष एवं अप्रत्यक्ष चिन्हों के आधार पर की जाती है। अभयारण्य के परिधि के संपूर्ण क्षेत्र में तार फेंसिंग नहीं हुई है।
परिक्षेत्र कार्यालय परिसर के भवन निर्माण की गुणवत्ता की जाँच
[वन]
10. ( *क्र. 3412 ) श्री सुखदेव पांसे : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कार्यालय वन परिक्षेत्राधिकारी पानीगांव (क्षे.) बिजवाड़, जिला देवास अंतर्गत परिक्षेत्र कार्यालय परिसर का नव-निर्मित भवन कितने वर्ग फिट में बना हुआ है? उसकी लागत क्या है? (ख) क्या प्रश्नांकित भवन के निर्माण में शासकीय मापदण्ड अनुसार मटेरियल लगाया है? उक्त भवन के निर्माण के लिये कार्यालय द्वारा विज्ञप्ति कब किस समाचार पत्र में निकाली गई एवं कितने टेण्डर प्राप्त हुए? (ग) प्रश्नांकित भवन निर्माण में किस इंजीनियर द्वारा यह कार्य करवाया गया? उसका नाम, पदस्थापना तथा समस्त कार्यों के बिल व्हाउचरों का विवरण देवें। (घ) वन परिक्षेत्र बिजवाड़, जिला देवास अंतर्गत सत्खालिया में जो वॉच टावर बना हुआ है, वह कितनी लागत का है? निर्माण पर व्यय राशि का विवरण दें। क्या वह निर्धारित मापदण्ड से बना है? इसके कार्य की गुणवत्ता एवं निर्माण का परीक्षण किस अधिकारी द्वारा कराया गया है?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) प्रश्नाधीन परिक्षेत्र अन्तर्गत नव-निर्मित वनरक्षक भवन 713 वर्ग फिट में बना है, जिसकी लागत रूपये 10 लाख है। (ख) जी हाँ। शेष जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 में है। (ग) प्रश्नाधीन भवन निर्माण इन्जीनियर द्वारा नहीं अपितु विभाग द्वारा कराया गया है। शेष जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-1 में है। (घ) जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र-2 में है।
खरमौर अभयारण्य के लिये कुल आरक्षित भूमि
[वन]
11. ( *क्र. 4446 ) श्री हर्ष विजय गेहलोत : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या सैलाना स्थित खरमौर अभयारण्य में वर्ष 2019 तथा 2020 में एक भी खरमौर पक्षी नहीं आया तथा वर्ष 2017 तथा 2018 में क्रमश: 4 तथा 5 पक्षी आये, ऐसी स्थिति में 1300 हेक्टेयर जमीन आरक्षित करना क्या आदिवासी क्षेत्र के विकास को अवरूद्ध नहीं करेगा? (ख) क्या वन्यजीव के अनुसार खरमौर पक्षी का अपने देश की भौगोलिक स्थिति को देखते हुए कोई महत्व नहीं हैं, न ही इसमें आकार बनावट की सुन्दरता है, न ही आवाज में कोई मधुरता है तथा न ही इसकी गतिविधि में कोई विविधता है? ऐसे में इस सामान्य पक्षी के लिये आदिवासी क्षेत्र सरदारपुर तथा सैलाना में 37 हजार हेक्टेयर जमीन को आरक्षित करने का क्या औचित्य है? क्या सरकार इस पर पूर्ण विचार करेगी? (ग) खरमौर पक्षी के इतिहास से अवगत कराया जाये तथा बतावें की प्रदेश में कहां-कहां पाया जाता है तथा म.प्र. के वन्य प्राणी में इसका क्या महत्व है तथा प्रदेश में किस-किस पक्षी के लिये कितने अभयारण्य बने हैं तथा उसमें कितनी जमीन आरक्षित की गई है? (घ) क्या अभयारण्य की घोषणा जिस मकसद के लिये की गई थी वह मकसद अब नहीं रहा तो इस घोषणा को निरस्त क्यों नहीं किया जाता? सरकार विशेषज्ञों की कमेटी गठित कर खरमौर जैसे सामान्य विदेशी पक्षी के लिये 37 हजार हेक्टेयर जमीन की उपयोगिता को बाधित करने पर विचार करेगी?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) यह सही है प्रश्नाधीन अभयारण्य में खरमोर काफी कम दिखे हैं। खरमोर दुर्लभ प्रजाति पक्षी के संरक्षण हेतु 1296.541 हेक्टेयर घासबीड़ क्षेत्र को सैलाना अभयारण्य अधिसूचित किया गया है। अभयारण्य के गठन मात्र से आदिवासी क्षेत्र का विकास अवरूद्ध हुआ है, ऐसा नहीं कहा जा सकता है। (ख) प्राकृतिक एवं पर्यावरणीय संतुलन बनाये रखने में प्रत्येक जीव की अहम भूमिका होती है। खरमोर एक दुर्लभ प्रजाति का पक्षी है, जिसे अंतर्राष्ट्रीय प्रकृति संरक्षण संघ (IUCN) द्वारा संकटापन्न घोषित किया गया है। इस कारण खरमोर पक्षी के संरक्षण एवं संवर्धन हेतु मध्यप्रदेश शासन द्वारा सरदारपुर अभयारण्य धार एवं सैलाना अभयारण्य रतलाम अधिसूचित किया गया है। (ग) लगभग 100 वर्ष पूर्व तक खरमोर पक्षी पूरे भारत वर्ष में पाये जाते थे। खरमोर पक्षी वर्तमान में गुजरात, राजस्थान और मध्यप्रदेश के कुछ भागों तक सीमित है। खरमोर पक्षी प्रजनन हेतु वर्षाऋतु में घास के मैदानी क्षेत्रों में प्रवास करते हैं तथा प्रजनन उपरान्त दक्षिण भारत में पलायन कर जाते हैं। विलुप्त खरमोर पक्षी को सन् 1980 में बाम्बे हिस्ट्री नेचुरल सोसाइटी के पक्षी विशेषज्ञ डॉ. सलीम अली की टीम ने सैलाना एवं सरदारपुर के आस-पास घास के मैदानों में देखा था। खरमोर पक्षी के संरक्षण, संवर्धन एवं उनके प्रजनन हेतु अनुकूल क्षेत्रों को वर्ष 1983 में सैलाना एवं सरदारपुर अभयारण्य के रूप में अधिसूचित किया गया था। अभयारण्यों का गठन कर खरमोर पक्षी के प्रजनन हेतु अनुकूल रहवास एवं सुरक्षा प्रदान करते हुए इस संकटापन्न पक्षी का संरक्षण एवं संवर्धन करना मुख्य उद्देश्य है। प्रदेश में अन्य पक्षियों के संरक्षण को ध्यान में रखते हुए सोन चिड़िया (GIB) के संरक्षण एवं संवर्धन हेतु करैरा अभयारण्य 202.21 वर्ग कि.मी. राजस्व क्षेत्र एवं घाटीगांव हुकना पक्षी अभयारण्य 398.92 वर्ग कि.मी. क्षेत्र अधिसूचित है। (घ) विगत 10 वर्षों में देखे गये खरमोर पक्षी की संख्या एवं स्थलों की जानकारी का आंकलन कर अभयारण्य के ऐसे क्षेत्र जहां खरमोर पक्षी नहीं देखे गये, उन्हें अभयारण्य से डिनोटिफाई किये जाने एवं ऐसे वन क्षेत्र जहां खरमोर पक्षी वर्तमान में भी देखे जा रहे हैं, को पुनर्गठन करने का प्रस्ताव विचाराधीन है। ऐसा पुनर्गठन भारत सरकार की सहमति उपरांत ही हो सकेगा।
जिला शिक्षा अधिकारी द्वारा नियम विरूद्ध शिक्षकों की पदस्थापना
[स्कूल शिक्षा]
12. ( *क्र. 5128 ) श्री पी.सी. शर्मा : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) मंदसौर नीमच जिले में माह फरवरी 2020 से प्रश्न दिनांक तक कितने प्राथमिक शिक्षक, माध्यमिक शिक्षक, उच्च माध्यमिक शिक्षक इसी प्रकार सहायक शिक्षक, शिक्षक, व्याख्याता की अध्यापन व्यवस्था स्वरूप अन्य विद्यालयों में किस आदेश के तहत व्यवस्था की गई है? आदेश क्रमांक/दिनांक बतावें। (ख) क्या अध्यापन व्यवस्था उसी संकुल में की गई है अथवा अन्य संकुल विकासखण्ड में की गई है? जारी आदेश का क्रमांक/दिनांक बतावें। (ग) प्रश्नांश (क) यदि आदेश वरिष्ठ कार्यालय द्वारा नहीं किये गये, तो उस जिला शिक्षा अधिकारी के विरूद्ध क्या कार्यवाही की जायेगी।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) मंदसौर एवं नीमच जिले के जिला शिक्षा अधिकारियों द्वारा अध्यापन व्यवस्था स्वरूप जारी आदेशों संबंधी जानकारी क्रमशः संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र 1 एवं 2 अनुसार है। (ख) उत्तरांश (क) अनुसार मंदसौर एवं नीमच जिले के द्वारा जारी आदेश क्रमशः पत्र दिनांक 01.03.2021 तथा 08.03.2021 द्वारा निरस्त कर दिये गए हैं। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश (क) अनुसार अध्ययन व्यवस्था स्वरूप जारी आदेशों के संबंध में मंदसौर एवं नीमच के जिला शिक्षा अधिकारियों को ''कारण बताओ सूचना पत्र'' जारी किया गया है।
तेंदूखेड़ा विधानसभा क्षेत्र में अधोसंरचना विकास कार्यों की स्वीकृति
[वन]
13. ( *क्र. 1016 ) श्री संजय शर्मा : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मध्यप्रदेश राज्य लघु वनोपज (व्यापार एवं विकास) सहकारी संघ मर्यादित भोपाल द्वारा वर्ष 2020 में तेंदूपत्ता व्यापार के शुद्ध आय की 20/15 प्रतिशत की अधोसंरचना विकास कार्यों की राशि से तेंदूखेड़ा विधानसभा क्षेत्र के ग्राम मर्रावन, सिल्हेटी, देवरी, बिल्गुवां एवं डोभी में सामुदायिक भवन निर्माण की स्वीकृति प्रदान की गई थी? (ख) प्रश्नांश (क) यदि हाँ, तो उपरोक्त निर्माण कार्यों की वर्तमान स्थिति क्या है? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार, क्या उपरोक्त कार्यों के टेंडर हो चुके हैं? यदि हाँ, तो इनकी निर्माण एजेंसियां कौन-कौन हैं? (घ) प्रश्नांश (क) अनुसार, उपरोक्त निर्माण कार्यों के कार्य अभी तक प्रारम्भ क्यों नहीं हुये हैं एवं निर्माण कार्य कब तक प्रारम्भ होंगे?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) कार्य तत्काल प्रारंभ करने हेतु प्रबंध संचालक, जिला यूनियन नरसिंहपुर को निर्देशित किया गया है। (ग) प्रश्नांश (क) में वर्णित कार्यों की निर्माण एजेंसी वन विभाग है। अतः उक्त कार्यों हेतु टेण्डर की आवश्यकता नहीं है। (घ) कोरोना लॉकडाउन, सामग्री क्रय हेतु म.प्र. भण्डार क्रय नियम तथा सेवा उपार्जन नियम 2015 के अंतर्गत प्रक्रिया पालन में समय लगने से कार्य प्रारम्भ नहीं किए जा सके। शेष उत्तरांश (ख) अनुसार।
वर्ष 2021-2022 की नई शिक्षा नीति लागू की जाना
[स्कूल शिक्षा]
14. ( *क्र. 5181 ) श्री जितू पटवारी : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश में केन्द्र सरकार द्वारा जारी नई शिक्षा नीति वर्ष 2021-2022 से लागू की जायेगी? यदि हाँ, तो इस शिक्षा नीति के अनुसार किस-किस विद्यालयीन पाठ्यक्रम में परिवर्तन करना होगा? नई शिक्षा नीति के अनुसार विद्यार्थियों में बस्तों का बोझ कम करने की क्या योजना है? (ख) शासन शासकीय विद्यालयों में गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा देने हेतु क्या योजना बना रहा है तथा क्या 10 हजार से अधिक विद्यालयों को बंद किये जाने का प्रस्ताव विचाराधीन है? यदि नहीं, तो कितने विद्यालयों को बंद किया जाना प्रस्तावित है? (ग) शासकीय विद्यालयों में किस-किस वर्ष से कौन-कौन सी कक्षाओं में मध्यान्ह भोजन वितरित किया जाता है तथा विद्यालय अनुसार मध्यान्ह भोजन की कुल संख्या के अनुसार तय होती है या उपस्थिति अनुसार तय होती है? क्या मध्यान्ह भोजन को लेकर पिछले 10 वर्ष में कोई घोटाले की जाँच की गई है? यदि हाँ, तो उसकी रिपोर्ट देवें। (घ) शासकीय विद्यालयों में वर्ष 2007-2008 से 2010-2011 तथा 2017-2020-21 कक्षा 1 से 12 तक के कक्षावार नामांकनांक बताएं।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। नवीन शिक्षा नीति अनुसार कार्यवाही प्रस्तावित की जाएगी। पाठ्यक्रम परिवर्तन एवं बस्ते का बोझ कम करने की योजना राष्ट्रीय पाठ्यक्रम फ्रेम वर्क स्कूल शिक्षा (NCFSE) के निर्देशानुसार होगी। (ख) सर्व सुविधा संपन्न 9200 विद्यालय स्थापित करने की योजना है। जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) वर्ष 2004 से कक्षा 1 से 5 में तथा वर्ष 2007-08 से कक्षा 6 से 8 में गर्म पका हुआ मध्यान्ह भोजन वितरण किया जा रहा है। उपस्थिति के आधार पर। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है।
स्टेट कैंसर यूनिट जबलपुर को प्रारंभ किया जाना
[चिकित्सा शिक्षा]
15. ( *क्र. 3324 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या मेडिकल कॉलेज जबलपुर के कैंसर हॉस्पिटल में व्यवस्थायें न होने के कारण लगभग 50-60 मरीज प्रतिदिन नागपुर एवं अन्य मेट्रो सिटी जाते हैं? (ख) क्या जबलपुर के कैंसर हॉस्पिटल में 150 से 200 मरीज आते हैं, परन्तु स्टाफ, उपकरण एवं बिस्तर सीमित होने के कारण बाहर जाना पड़ता है या इंतजार करना पड़ता है? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के अनुसार यदि हाँ, तो नव-निर्मित स्टेट कैंसर इंस्टीट्यूट को प्रारंभ करने में क्या कठिनाई है? (घ) कब तक इंस्टीट्यूट प्रारंभ किया जावेगा?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) एवं (ख) जी नहीं। (ग) उत्तरांश (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) स्टेट कैंसर इंस्टीट्यूट निर्माणाधीन होने के कारण प्रारंभ नहीं किया जा सका है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
वंशकार समाज के हितग्राहियों को परमिट/बांस का प्रदाय
[वन]
16. ( *क्र. 4356 ) श्री सोहनलाल बाल्मीक : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वंशकार समाज के हितग्राहियों को परमिट व बांस प्रदान किए जाने के संबंध में शासन के क्या दिशा निर्देश/नियमावली है? छायाप्रति उपलब्ध करायें। (ख) परासिया विधानसभा क्षेत्र में वन विभाग द्वारा विगत 3 वर्षों से वर्तमान अवधि तक वंशकार समाज के हितग्राहियों को बांस प्राप्त करने हेतु कितने परमिट जारी किये गये हैं? सूची उपलब्ध कराएं। (ग) क्या शासन के नियमानुसार वंशकार समाज के हितग्राहियों को उनके व्यवसाय/रोजगार चलाने हेतु बांस आवश्यकता अनुसार नियमित रूप से समय पर प्रदान किया जाना है? परन्तु परासिया विधानसभा क्षेत्र में वंशकार समाज के हितग्राहियों को समय पर नियमित रूप से बांस प्रदान नहीं किए जा रहे हैं, जिससे वंशकार समाज के लोगों को अपनी अजीविका चलाने में अत्यंत परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है, जिसका क्या कारण है? (घ) वंशकार समाज के हितग्राहियों को शासन के नियमानुसार उनकी आवश्यकता अनुसार समय पर कब से नियमित रूप से बांस उपलब्ध कराये जायेंगे?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) वन विभाग द्वारा वंशकार समाज के हितग्राहियों को बांस प्रदाय किये जाने के संबंध में शासन के दिशा निर्देश की छायाप्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) छिंदवाड़ा जिले के परासिया विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत वंशकार समाज के हितग्राहियों को वन विभाग द्वारा विगत तीन वर्षों में वर्तमान अवधि तक जारी किये गये बसोड़ पंजी की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ग) म.प्र. शासन वन विभाग द्वारा वंशकार समाज के प्रत्येक हितग्राहियों को व्यवसाय चलाने हेतु नियमित रूप से उपलब्धता अनुसार बांस का वितरण किया जाता है। परासिया विधानसभा क्षेत्र में वंशकार समाज के हितग्राहियों को नियमित रूप से बांस प्रदाय किया जा रहा है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उपरोक्त (ग) के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
जिला छतरपुर अंतर्गत वन भूमि का व्यवस्थापन
[वन]
17. ( *क्र. 1941 ) श्री कुँवर विक्रम सिंह : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या छतरपुर वन व्यवस्थापन अधिकारी द्वारा सूरजपुरा वनखण्ड से निजी भूमि को पृथक किये जाने के आदेश के विरूद्ध वनमण्डल ने कलेक्टर एवं अपीलीय अधिकारी छतरपुर के समक्ष प्रश्नांकित दिनांक तक भी कोई अपील प्रस्तुत नहीं की? (ख) सूरजपुरा वन खण्ड में किस ग्राम के किस किसान के किस खसरा नं. का कितना रकबा शामिल किये किस खसरा नं. का पट्टे पर आवंटित कितना रकबा शामिल किया? इसमें से किस प्रकरण क्रमांक आदेश दिनांक में कितना रकबा वनखण्ड के बाहर पृथक किया? आदेश की प्रति सहित बतावें। (ग) वन व्यवस्थापन अधिकारी एवं अनुविभागीय अधिकारी राजस्व छतरपुर द्वारा निजी भूमि पृथक किये जाने के दिये आदेश के विरूद्ध वन विभाग ने कलेक्टर छतरपुर के समक्ष किस दिनांक को अपील प्रस्तुत की। (घ) निजी भूमि को वनखण्ड एवं वर्किंग प्लान से पृथक करने की कार्यवाही प्रश्नांकित दिनांक तक भी नहीं किये जाने का क्या कारण है? कब तक भूमि पृथक कर दी जावेगी?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) से (घ) जानकारी संकलित की जा रही है।
पशुधन संजीवनी योजना संचालन में अनियमितता
[पशुपालन एवं डेयरी]
18. ( *क्र. 4164 ) श्री कुँवरजी कोठार : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विभाग द्वारा पशुपालकों को घर पहुंच सेवा प्रदान करने हेतु 1962 पशुधन संजीवनी योजना प्रारम्भ की गई है? योजना प्रारम्भ से प्रश्न दिनांक तक योजनान्तर्गत राजगढ़ जिले में किस फर्म/ठेकेदार की वाहन लगाई गई है? वाहन का प्रकार, अनुबंध की शर्त, दर तथा वाहन पर कार्यरत वाहन चालक के नाम की जानकारी विकासखण्डवार देवें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार 1962 पशुधन संजीवनी वाहन अनुबंध अनुसार कितने-कितने कि.मी. प्रतिमाह चलाये जाने के नियम हैं? यदि तय कि.मी. से अधिक वाहन चलाया गया है तो अतिरिक्त कि.मी. का भुगतान कैसे किया जाता है? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार अनुबंध वाहन प्रत्येक माह कितने कि.मी. चली तथा वाहन पर उपस्थित चालक का सत्यापन किन-किन अधिकारी द्वारा किया गया? माहवार विकासखण्डवार जानकारी देवें। (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार फर्म/वाहनकर्ता द्वारा क्या अनुबंध के मापदण्ड अनुसार वाहन नहीं चलाये जाने के उपरांत भी आहरण अधिकारी द्वारा भुगतान किया गया है?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी हाँ। योजना प्रारंभ से प्रश्न दिनांक तक योजनांतर्गत राजगढ़ जिले में देव एन्टरप्राईसेस, वार्ड क्रमांक 2 माचलपुर रोड, जीरापुर, जिला राजगढ़ की वाहन लगाई गई है। अनुबंध की शर्त संबंधी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। शेष जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है। (ख) 1962 पशुधन संजीवनी योजनांतर्गत वाहन की दर एक पैरावेट (विभागीय प्रशिक्षित गौसेवकों), वाहन चालक तथा प्रतिमाह 1800 कि.मी. से अधिक दूरी तय करने हेतु डीजल व्यय को सम्मिलित करते हुए निर्धारित की गई है एवं तय कि.मी. से अधिक वाहन चलाने पर राशि रूपये 6.00 प्रति कि.मी. के मान से भुगतान किए जाने का प्रावधान है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'स' अनुसार है। (घ) जी हाँ। विकासखण्ड ब्यावरा में अनुबंधित फर्म द्वारा माह जनवरी 2020 में वाहन उपलब्ध नहीं कराये जाने के उपरांत भी संबंधित फर्म द्वारा प्रस्तुत देयक का भुगतान किया गया था। संबंधित फर्म को अनुबंध के विपरीत भुगतान की गई राशि की वसूली एवं संबंधित आहरण संवितरण अधिकारी पर भी अधिक भुगतान की गई राशि के संबंध में कार्यवाही की जा रही है।
धार जिलांतर्गत अनुकम्पा नियुक्ति के लंबित प्रकरणों का निराकरण
[जनजातीय कार्य]
19. ( *क्र. 5369 ) श्री सुरेन्द्र सिंह हनी बघेल : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या शिक्षा विभाग द्वारा अनुकम्पा नियुक्ति के लंबित प्रकरणों के निराकरण हेतु नियमों में शिथिलता दी जाकर अनुकंपा नियुक्ति के प्रकरणों का निराकरण किया जा रहा है? उसी प्रकार जनजातीय कार्य विभाग में भी लंबित अनुकम्पा नियुक्ित के प्रकरणों के निराकरण हेतु शिक्षा विभाग की तरह नियमों में शिथिलता प्रदाय की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों नहीं? (ख) धार जिले में जनजातीय कार्य विभाग में दिनांक 01 जनवरी, 2014 से 17.02.2021 तक अनुकम्पा नियुक्ति के कितने आवेदन विभाग में पंजीबद्ध हुए हैं? जानकारी आवेदक का नाम, मृतक का नाम, पदस्थ संस्था, निवास ग्राम सहित विधानसभावार देवें। उनमें से कितने प्रकरणों का निराकरण कर दिया गया है? जानकारी आवेदक का नाम, मृतक का नाम, पदस्थ संस्था, निवास ग्राम निराकरण में क्या लाभ दिया? विधानसभावार देवें। (ग) कितने प्रकरण शेष हैं? शेष रहने के कारण सहित सम्पूर्ण जानकारी आवेदक का नाम, मृतक का नाम, पदस्थ संस्था, निवास ग्राम सहित विधानसभावार देवें। इनका निराकरण कब तक कर दिया जावेगा?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ। प्रकरण परीक्षणाधीन है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ख) धार जिले में जनजातीय कार्य विभाग में दिनांक 01 जनवरी, 2014 से 17.02.2021 तक 366 अनुकम्पा नियुक्ति के आवेदन विभाग में पंजीबद्ध हुये हैं। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। उनमें से 197 प्रकरणों का निराकरण कर दिया गया है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। (ग) धार जिले में जनजातीय कार्य विभाग में 169 प्रकरण शेष हैं। प्रकरण लंबित रहने के कारण सहित संपूर्ण जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है। सीधी भर्ती का पद रिक्त होने पर निराकरण किया जा सकेगा। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
मा.शाला बडेरा (टीकमगढ़) में 08 वर्ष से अनुपस्थित अध्यापिका के विरूद्ध कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
20. ( *क्र. 4194 ) श्री राहुल सिंह लोधी : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या दिनांक 10.07.2019 को कलेक्टर-टीकमगढ़ द्वारा मा. शाला बडेरा का आकस्मिक निरिक्षण किया गया, जहाँ शिक्षिका वंदना त्रिपाठी पिछले 08 वर्षों से अनुपस्थित पाई गई? (ख) यदि हाँ, तो कलेक्टर-टीकमगढ़ द्वारा उन पर क्या कार्यवाही की गई? (ग) क्या वंदना त्रिपाठी विगत 08 वर्षों से अनुपस्थित रहने के बाद भी फर्जी हस्ताक्षर कर सतत् वेतन प्राप्त करती रहीं थीं? यदि हाँ, तो धोखाधड़ी एवं वेतन वसूली के लिए शासन द्वारा क्या कार्यवाही की गई? (घ) संकुल केन्द्र भेलसी के प्राचार्य, मा.शाला बडेरा के प्रधानाचार्य एवं बी.आर.सी. बल्देवगढ़, इन सभी पर अपने कार्य में लापरवाही बरतने पर आज दिनांक तक क्या कार्यवाही की गई? (ड.) क्या निलंबन अवधि के दौरान वंदना त्रिपाठी अपनी उपस्थिति दर्ज करा रही हैं? यदि हाँ, तो कहाँ? (च) क्या मंत्री जी इस गंभीर प्रकरण की उच्च स्तरीय जाँच करायेंगे? यदि हाँ, तो कब तक?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) दिनांक 10.07.2019 को कलेक्टर टीकमगढ़ द्वारा शासकीय माध्यमिक शाला बडेरा के आकस्मिक निरीक्षण के दौरान श्रीमती वंदना त्रिपाठी शाला में उपस्थित थी, किन्तु ग्रामवासियों द्वारा उनके 8 वर्षों से अनुपिस्थत रहने का पंचनामा दिया गया। (ख) ग्रामवासियों द्वारा की गई शिकायत एवं पंचनामा के आधार पर श्रीमती वंदना त्रिपाठी को प्रथम दृष्टया दोषी पाये जाने के कारण मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत टीकमगढ़ के आदेश क्र./स्था-2/2019/2141, दिनांक 15.07.2019 द्वारा श्रीमती त्रिपाठी को निलंबन किया गया तथा आदेश क्र./शिक्षा/स्था-2/2020/1592, दिनांक 12.03.2020 से उनके विरूद्ध विभागीय जाँच संस्थित की गई। (ग) श्रीमती त्रिपाठी 01 जनवरी, 2010 से 31.03.2018 तक संस्था में अकेली ही पदस्थ रही हैं, उन्होंने उक्त अवधि की उपस्थिति पंजी उपलब्ध नहीं कराई है। दिनांक 01 अप्रैल, 2018 से जुलाई 2019 में उनके निलंबन होने तक की अविध तक की उपस्थित पंजी उपलब्ध है, जिसमें उनके 03 प्रकार के हस्ताक्षर पाये गये हैं। प्रथम दृष्टया दोषी पाये जाने पर उन्हें निलंबित कर उनके विरूद्ध विभागीय जाँच संस्थित की गई है। जाँच प्रतिवेदन प्राप्त होने पर गुणदोष के आधार पर कार्यवाही की जावेगी। (घ) संकुल केन्द्र प्राचार्य भेलसी, प्रधानाध्यापक शासकीय माध्यमिक शाला बडेरा एवं बी.आर.सी. बल्देवगढ़ को कार्य में लापरवाही बरतने पर कारण बताओ सूचना पत्र क्रमांक/सर्तकता/वि.स./2020/1713, दिनांक 20.03.2020 द्वारा जारी कर जबाव चाहा गया। प्राप्त उत्तर के आधार पर सर्व-संबंधितों के विरूद्ध विभागीय जाँच संस्थित करने की कार्यवाही प्रचलन में है। (ड.) श्रीमती वंदना त्रिपाठी अध्यापक को दिनांक 15.07.2019 को निलंबित किया जाकर मुख्यालय विकास खण्ड शिक्षा अधिकारी पलेरा नियत किया गया था। श्रीमती त्रिपाठी निलंबित अध्यापक द्वारा मुख्यालय पर दिनांक 18.07.2019, 16.09.2019 एवं 17.09.2019 को मुख्यालय पर उपस्थित हुई, इसके बाद आज दिनांक तक मुख्यालय पर उपस्थिति नहीं दी गई। (च) प्रश्नांश (ख) के उत्तर के प्रकाश में संबंधितों को निलंबित कर विभागीय जाँच संस्थित की जा चुकी है। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
श्योपुर में अनुकम्पा नियुक्ति के लम्बित आवेदन
[जनजातीय कार्य]
21. ( *क्र. 5221 ) श्री बाबू जण्डेल : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या जनजातीय कार्य विभाग श्योपुर में अनुकम्पा नियुक्ति के आवेदन लम्बित हैं? यदि हाँ, तो कितने आवेदन प्राप्त हुए? वरीयता अनुसार सबसे पहले प्राप्त आवेदनों के क्रम में दिनांक सहित सूची उपलब्ध करावें। (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार प्राप्त आवेदनों में से प्रश्न दिनांक तक किन-किन आवेदकों को अनुकम्पा नियुक्ति दी गई? (ग) प्रश्नांश (ख) अनुसार प्रदाय अनुकम्पा नियुक्ति नियमानुसार प्राप्त आवेदनों में से शासन निर्देशानुसार वरीयता क्रम में की गई है? यदि नहीं, तो नियम निर्देशों के तहत वरीयता क्रम का पालन नहीं किये जाने के दोषी शाखा प्रभारी के खिलाफ क्या शासन स्तर से कोई कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो क्या एवं कब तक? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) जनजातीय कार्य विभाग श्योपुर में सहायक ग्रेड-3 के पद पर पदस्थ श्री लोकेन्द्र सिंह भदौरिया की विभाग में नियुक्ति किस आदेश के तहत किस अधिकारी द्वारा शासन के कौन से नियम निर्देशों के तहत की गई है? इनके विरूद्ध कितनी शिकायतें प्राप्त हुईं? प्राप्त शिकायतों पर जाँच उपरान्त क्या कार्यवाही की गई?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ जनजातीय कार्य विभाग जिला श्योपुर में वर्तमान में 02 अनुकम्पा नियुक्ति के आवेदन चतुर्थ श्रेणी के लंबित हैं। वरीयता अनुसार दिनांक सहित सूची संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) जानकारी निरंक है। (ग) अनुकम्पा नियुक्ति नहीं किये जाने के कारण प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (घ) जनजातीय कार्य विभाग, श्योपुर में द्वितीय श्रेणी लिपिक के पद पर श्री लोकेन्द्र सिंह भदौरिया की नियुक्ति कलेक्टर, शिवपुरी के आदेश क्रमांक/आ.जा.क./स्था./92/1972, दिनांक 15.10.1992 द्वारा की गई थी, जानकारी संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है। म.प्र. शासन, आ.जा.क. विभाग से जारी डेलीगेशन ऑफ पॉवर दिनांक 28.09.1964 के तहत् कलेक्टर को अधिकार प्रदत्त हैं। शिकायत के संबंध में विस्तृत विवरण संलग्न परिशिष्ट के प्रपत्र ''स'' अनुसार है।
नरसिंहपुर जिलांतर्गत ग्राम निवासी में आदर्श मा. विद्यालय का संचालन
[स्कूल शिक्षा]
22. ( *क्र. 5478 ) श्री जालम सिंह पटैल : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या ग्राम पंचायत निवारी तह. करेली व जिला नरसिंहपुर के ग्राम निवारी में आदर्श माध्यमिक विद्यालय का संचालन हो रहा है तथा समिति के अध्यक्ष बसंत चौरसिया हैं? (ख) क्या उक्त विद्यालय संचालन के सभी नियमों का पालन किया जा रहा है? यदि हाँ, तो क्या पर्याप्त कमरे हैं, क्या खेल का मैदान है, क्या उपयुक्त शौचालय की व्यवस्था है, क्या योग्य शिक्षकों के द्वारा अध्यापन कार्य कराया जा रहा है? यदि नहीं, तो क्या उक्त विद्यालय की मान्यता रद्द की जायेगी? (ग) क्या यह विद्यालय शासकीय भूमि पर अतिक्रमण कर संचालित किया जा रहा है? यदि हाँ, तो भूमि को कब तक अतिक्रमण मुक्त किया जावेगा?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। जी हाँ। (ख) प्रकरण की जाँच करायी जा रही है। जाँच में प्राप्त अभिमत के आधार पर नियमानुसार कार्यवाही की जायेगी। (ग) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न नहीं उठता।
कटनी में शासकीय विद्यालयों का संचालन एवं एकीकरण
[स्कूल शिक्षा]
23. ( *क्र. 5483 ) श्री संदीप श्रीप्रसाद जायसवाल : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) तहसील कटनी अंतर्गत हाई स्कूल, हायर सेकेण्ड्री के कितने और कौन-कौन से शासकीय विद्यालय किन-किन स्थानों पर संचालित हैं? विद्यालयों में किन-किन विषयों/श्रेणी के कितने एवं कौन-कौन शिक्षक/अध्यापक/संविदा शिक्षक/अतिथि शिक्षक पदस्थ/कार्यरत हैं एवं कितने और कौन-कौन से शैक्षणिक पद कब से रिक्त हैं? विद्यार्थियों की वर्तमान सत्र में दर्ज संख्या कितनी-कितनी है? कक्षावार, विद्यालयवार बतायें। (ख) प्रश्नांश (क) क्या कई विद्यालयों में अध्यनरत विद्यार्थियों की संख्या और पदस्थ/कार्यरत शिक्षक आदि नियत मानकों से कम और कई विद्यालयों में अधिक हैं? यदि हाँ, तो किन-किन विद्यालयों में और विद्यालयों में व्याप्त असमानता के निराकरण के लिए विगत 02 वर्षों में कटनी-ब्लॉक/जिला और विभाग/शासन स्तर से क्या कार्यवाही की गयी? (ग) प्रश्नांश (ख) क्या विद्यालयों के एकीकरण/सम्मिलन के लिए कोई कार्यवाही विभाग/शासन स्तर पर प्रचलन में है? यदि हाँ, तो किन-किन विद्यालयों के एकीकरण/सम्मिलन के क्या-क्या प्रस्ताव विभाग/शासन को कब-कब प्राप्त हुये? प्रश्न-दिनांक तक की गयी कार्यवाही से अवगत करायें और विद्यालयों के एकीकरण/सम्मिलन अब तक न होने का कारण बतायें। (घ) प्रश्नांश (क) से (ग) के परिप्रेक्ष्य में आगामी शैक्षणिक सत्र में शासकीय विद्यालयों के संचालन की विभाग/शासन और कटनी-जिला प्रशासन/विभाग की क्या कार्य योजना है और क्या विद्यालयों के एकीकरण/सम्मिलन की स्वीकृति सत्र प्रारम्भ होने के पूर्व प्रदाय की जायेगी? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जी हाँ। उत्तरांश (क) अनुसार। युक्तियुक्तकरण की कार्यवाही नहीं हो सकी। (ग) जी हाँ। विद्यालयों में शिक्षक/छात्र मानक अनुपात निर्धारित करने हेतु सत्र 2018 से एक परिसर एक शाला योजना के तहत तय मानक अनुसार एकीकरण की प्रक्रिया पूर्ण कर ली गई है। एकीकरण के अधिकार जिला स्तर पर ही थे, अतः प्रस्ताव प्राप्त नहीं हुए। उत्तरांश (क) अनुसार। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) सत्र 2020-21 में कोविड-19 के कारण कक्षा 1 से 8 की शालायें बंद हैं। कक्षा 9 से 12 के हाई/हायर सेकेण्डरी स्कूल नियमित/अतिथि शिक्षकों के माध्यम से 18 दिसम्बर 2020 से अध्ययन अध्यापन प्रारंभ हैं। एक परिसर एक शाला में चयनित शालायें प्रारंभ हैं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
स्कूल परिसरों में निजी आयोजनों पर प्रतिबंध
[स्कूल शिक्षा]
24. ( *क्र. 5213 ) श्री राकेश गिरि : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) स्कूल परिसरों में विभागीय शैक्षणिक आयोजनों के अतिरिक्त अन्य निजी आयोजनों, टूर्नामेंट, विवाह भोज आदि के कार्यक्रम आयोजित करने के क्या नियम हैं? नियमों की प्रति दें। (ख) टीकमगढ़ जिला मुख्यालय के नजरबाग स्थित, शासकीय कन्या उच्चतर माध्यमिक विद्यालय टीकमगढ़ के परिसर में वित्त वर्ष 2017-18 से 31.01.2021 तक की अवधि में कितनी सभायें/टूर्नामेंट/विवाह भोज/सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित हुये? आयोजक का नाम, पता, आयोजन अवधि, परिसर उपयोग की अनुमति तथा प्राप्त शुल्क का वर्षवार एवं आयोजनवार ब्यौरा दें। (ग) आयोजन अवधि के दौरान एकत्र भीड़ और शोरगुल से क्या अध्यापन कार्य प्रभावित नहीं होता है? यदि हाँ, तो ऐसे आयोजनों की अनुमति क्यों दी जाती है? (घ) प्रश्नांश (ख) अनुसार, नगर के बाहर मैरिज गार्डन, स्टेडियम, उपलब्ध होने पर भी परिसर में आयोजन क्यों कराये जाते हैं? इसके लिये कौन जिम्मेवार है? पदनाम बतायें। क्या बालिका शिक्षा के दृष्टिगत स्कूल परिसर में शिक्षा के अतिरिक्त अन्य आयोजनों पर प्रतिबंध लगाया जायेगा? यदि हाँ, तो समय बतायें? यदि नहीं, तो कारण बतायें।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) जानकारी निंरक है। (ग) शाला में गैर शैक्षणिक आयोजन नहीं होने के कारण शेषांश का प्रश्न उद्भूत नहीं होता है। (घ) उत्तरांश (ग) के अनुक्रम में शेषांश का प्रश्न उद्भूत नहीं होता है।
पन्ना टाईगर रिजर्व के अंतर्गत आने वाले गांवों का विस्थापन
[वन]
25. ( *क्र. 5087 ) श्री राजेश कुमार शुक्ला : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) पन्ना टाईगर रिजर्व की परीधि में विधानसभा क्षेत्र बिजावर के किन-किन गांवों को विस्थापित करने की कार्यवाही प्रचलन में है? (ख) प्रश्नांश (क) के अनुक्रम में क्या उक्त गांवों को केन-बेतवा लिंक परियोजना के अंतर्गत डूब क्षेत्र में आने के कारण विस्थापित किया जाना प्रस्तावित है? (ग) प्रश्नांश (ख) हाँ तो उक्त गांवों को कहां पर विस्थापित किया जावेगा? कितने लोग विस्थापित होंगे? उन्हें क्या-क्या मुआवजा दिया जावेगा? विस्थापन की शर्तें क्या होंगी? विस्थापन के पूर्व एवं बाद में क्या-क्या सुविधाएँ प्रदाय की जावेंगी?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) पन्ना टाइगर रिजर्व के विधानसभा क्षेत्र बिजावर के अंतर्गत आने वाले ग्रामों में से बफर जोन के ग्राम संतसलैया के विस्थापन की कार्यवाही प्रचलन में है। टाइगर रिजर्व के कोर क्षेत्र को वन्यप्राणी (संरक्षण) अधिनियम, 1972 की धारा 38V के अनुसार Inviolate करने की वैधानिक अनिवार्यता के कारण ग्राम ढोड़न, पलकोहा एवं खरियानी को विस्थापित किया जाना प्रस्तावित है। (ख) पन्ना टाइगर रिजर्व के कोर क्षेत्र के ग्राम ढोड़न, पलकोहा एवं खरियानी केन-बेतवा लिंक परियोजना के डूब क्षेत्र में आने के कारण इनका विस्थापन राष्ट्रीय जल विकास अभिकरण द्वारा किया जाना प्रस्तावित है। (ग) उत्तरांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में विस्थापन शासन के तत्समय नियमों के अंतर्गत किया जायेगा। प्रश्नांश की जानकारी विस्थापन प्रक्रिया प्रारंभ होने पर ही उपलब्ध हो सकेगी।
भाग-2
नियम
46 (2) के
अंतर्गत
अतारांकित
प्रश्नोत्तर
के रुप में
परिवर्तित
तारांकित
प्रश्नोत्तर
अंग्रेजी
माध्यम स्कूलों
का संचालन
[स्कूल शिक्षा]
1. ( क्र. 59 ) श्री पुरुषोत्तम लाल तंतुवाय : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) दमोह जिले में अंग्रेजी माध्यम के किस कक्षा से किस कक्षा तक कितने स्कूल संचालित है। संख्या बताने के साथ-साथ जिला दमोह की अंग्रेजी माध्यम से संचालित स्कूलों की सूची प्रदाय करें। (ख) क्या कक्षा 6 से 8 तक ही अंग्रेजी माध्यम से स्कूल पूर्व व बाद की कक्षाओं के अंग्रेजी में संचालन की कोई रूपरेखा शासन द्वारा बनायी गयी है? यदि हाँ, तो कक्षा 1 से 5 तक व कक्षा 9 से 12 तक अंग्रेजी माध्यम के स्कूल कब तक संचालित हो जावेगी?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है। (ख) सी.एम. राइज सर्व सुविधा सम्पन्न स्कूल खोलने की योजना की स्वीकृति की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
पेंशन का भुगतान
[सामाजिक न्याय एवं निःशक्तजन कल्याण]
2. ( क्र. 95 ) श्री रामपाल सिंह : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) फरवरी 2021 की स्थिति में रायसेन जिले में कितने हितग्राहियों को कौन-कौन सी पेंशन का भुगतान प्रतिमाह किया जा रहा है? नगरीय निकाय एवं ग्राम पंचायतवार संख्या बतायें। (ख) फरवरी 2021 की स्थिति में संबंधित हितग्राहियों को किस माह तक की पेंशन का भुगतान हुआ है तथा प्रतिमाह पेंशन का भुगतान क्यों नहीं हो रहा है? पेंशन का भुगतान किस माध्यम से कैसे किया जाता है? (ग) क्या दिव्यांग, विधवा एवं वृद्धजनों को उनके घर पर ही पेंशन मिले तथा पेंशन प्राप्त करने हेतु हितग्राही को 5 किमी. से दूर न जाना पड़े इस हेतु ''पेंशन आपके द्वार'' व्यवस्था के अंतर्गत बैंकिंग करेस्पान्डेंट के माध्यम से पेंशन का भुगतान करवाया जा रहा है? (घ) यदि प्रश्नांश (ग) हाँ तो रायसेन जिले की किन-किन ग्रामपंचायतों में किन-किन बैंकिंग करेस्पान्डेंट के माध्यम से जनवरी 19 से प्रश्न दिनांक तक कब-कब पेंशन का भुगतान किया गया? यदि नहीं, तो क्यों कारण बतायें।
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र "अ" अनुसार। (ख) जनवरी पेड फरवरी 2021 तक की समस्त पेंशन योजनाओं का भुगतान पेंशन हितग्राहियों के खाते में किया जा चुका है। स्थानीय निकायों से प्राप्त प्रपोजल के आधार पर विभाग स्तर से बैंक के माध्यम से सीधे हितग्राहियों के बैंक खातों में पेंशन का भुगतान प्रतिमाह किया जाता है। (ग) जी हाँ। (घ) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र "ब" अनुसार।
वनभूमि के पट्टे का निराकरण
[जनजातीय कार्य]
3. ( क्र. 96 ) श्री रामपाल सिंह : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) फरवरी 2021 की स्थिति में रायसेन जिले में कितने वन अधिकार (वन भूमि के पट्टा) के आवेदन पत्र कब से किस स्तर पर क्यों लंबित हैं? उनका कब तक निराकरण होगा? (ख) सामुदायिक दावा किन-किन भूमियों एवं स्थानों पर किया जा सकता है इस संबंध में शासन के क्या-क्या निर्देश हैं उनकी प्रति दें। फरवरी 2021 की स्थिति में किन-किन ग्राम सभाओं से पारित प्रकरण कब से किस स्तर पर क्यों लंबित हैं उनका कब तक निराकरण होगा? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के प्रकरणों के संबंध में 1 अप्रैल 2019 से प्रश्न दिनांक तक माननीय मंत्री जी एवं विभाग को रायसेन जिले के किन-किन सांसद/विधायकों के पत्र कब-कब प्राप्त हुए तथा उन पर क्या-क्या कार्यवाही की गई? (घ) सांसद/विधायकों से प्राप्त पत्रों में किन-किन समस्याओं का निराकरण हुआ तथा किन-किन समस्याओं का निराकरण क्यों नहीं हुआ तथा की गई कार्यवाही से अवगत क्यों नहीं कराया? कब तक, अवगत कराएंगे।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) फरवरी 2021 की स्थिति में पूर्व के निरस्त जनजाति वर्ग के 160 एवं अन्य परम्परागत के 2239 दावों का निराकरण एम.पी. वन मित्र पोर्टल के माध्यम से किया जा रहा है। उपरोक्त दावे जिला स्तर समिति के स्तर पर परीक्षण हेतु लंबित है। वन अधिकार की प्रक्रिया अर्द्ध न्यायिक स्वरूप की होने से समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ख) अनुसूचित जनजाति और अन्य परम्परागत वन निवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम 2006 के नियम 3 (1) में सामुदायिक दावों एवं शासन के द्वारा जारी किये गये निर्देश की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''एक'' अनुसार है। उत्तरांश ''क'' अनुसार। (ग) एवं (घ) माननीय विधायक महोदय द्वारा विभागीय मंत्रीजी एवं विभाग को उपलब्ध कराये गये पत्र, जिला रायसेन को प्राप्त हुए है, जिनकी जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''दो'' अनुसार है।
दुग्ध विज्ञान एवं खाद्य प्रौद्योगिकी महाविद्यालय की स्थापना
[पशुपालन एवं डेयरी]
4. ( क्र. 217 ) श्री तरूण भनोत : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जबलपुर में पशु चिकित्सा विज्ञान विश्व विद्यालय के अंतर्गत दुग्ध एवं खाद्य प्रौद्योगिकी महाविद्यालय की स्थापना के लिए बजट में प्रावधान किया गया है? यदि हाँ, तो पूर्ण विवरण प्रस्तुत किया जाये। (ख) प्रश्नांश (क) में वर्णित महाविद्यालय के लिए क्या प्रशासनिक एवं वित्तीय आदेश जारी कर दिये गये है? यदि हाँ, तो उनका विवरण देवें। (ग) उक्त महाविद्यालय के अभी तक प्रारंभ न हो सकने का क्या कारण है, तथा बजट में प्रावधान होने के बावजूद अब तक हुए विलम्ब के लिए कौन उत्तरदायी है? (घ) बजट प्रावधान होने के बावजूद कार्य में विलम्ब के लिए क्या राज्य शासन उत्तरदायित्व निर्धारित करेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी हाँ। वित्तीय वर्ष 2019-2020 में राशि रू. 200.00 लाख एवं वित्तीय वर्ष 2020-2021 में राशि रू. 200.00 लाख का बजट प्रावधान किया गया है। (ख) जी नहीं शेष प्रश्न उपस्थिति नहीं होता। (ग) प्रश्नांश (ख) के उत्तर के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थिति नहीं होता। (घ) जी नहीं।
पेड सीनियर सिटीजन होम का निर्माण
[सामाजिक न्याय एवं निःशक्तजन कल्याण]
5. ( क्र. 218 ) श्री तरूण भनोत : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जबलपुर में सामाजिक न्याय विभाग द्वारा पेड सीनियर सिटीजन होम के निर्माण के लिए निर्णय लिया गया है तथा क्या इस प्रयोजन के लिए शासकीय भूमि आरक्षित कर ली गई है? यदि हाँ, तो पूर्ण ब्यौरा प्रस्तुत करें। (ख) पेड सीनियर सिटीजन होम, जबलपुर कितने लाभार्थियों के उपयोग हेतु बनेगा तथा इस कार्य के लिए कितनी धनराशि स्वीकृत की गई है तथा क्या राशि का आवंटन कर दिया गया है? (ग) भूमि आवंटन होने के उपरांत भी अभी तक कार्य प्रारंभ न होने का क्या कारण है तथा इस विलम्ब के लिए क्या उत्तरदायित्व निर्धारित किया जावेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी नहीं। जन प्रतिनिधियों की मांग पर जबलपुर जिले में, पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार भूमि आरक्षित की गई है। (ख) 100 वरिष्ठजन की क्षमता हेतु राशि रूपये 1083.36 लाख का संभागीय परियोजना यंत्री लोक निर्माण विभाग परियोजना क्रियान्वयन इकाई जबलपुर द्वारा प्राक्कलन तैयार किया है। भवन निर्माण कार्य स्वीकृत नहीं होने से राशि आवंटन का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) उत्तरांश ''क'' के अनुसार प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
आदिवासी उपयोजना के अंतर्गत संचालित योजनायें
[जनजातीय कार्य]
6. ( क्र. 495 ) श्री आशीष गोविंद शर्मा : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) विभाग द्वारा आदिवासी उपयोजना के अंतर्गत कौन-कौन सी योजनायें संचालित हैं? योजनाओं के नाम बतावें। (ख) क्या विभाग द्वारा आदिवासी उपयोजना के अंतर्गत आदिवासी वर्ग के कृषकों के खेतों पर तालाब स्टाप डेम, विद्युत व्यवस्था जैसी योजनाओं के अंतर्गत लाभान्वित किये जाने का प्रावधान हैं? (ग) अगर प्रश्नांश (ख) सही है तो खातेगांव विधानसभा क्षेत्र के किन-किन ग्रामों के आदिवासी कृषकों को उक्त योजनाओं का लाभ दिया गया? ग्रामों एवं कृषकों की संख्या बतावें। (घ) खातेगांव विधान सभा क्षेत्र के कितने आदिवासी कृषकों के कालम (ख) के अनुसार लम्बित प्रकरण है? कृषकों के नाम एवं ग्रामों के नाम बतावें।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) संचालनालय, आदिम जाति क्षेत्रीय विकास योजनाएं के परिपेक्ष्य में भारत सरकार द्वारा 100 प्रतिशत केन्द्र पोषित, आदिवासी उपयोजना विशेष केन्द्रीय सहायता एवं संविधान के अनुच्छेद 275 (1) संचालित है। (ख) जी हाँ। (ग) एकीकृत आदिवासी विकास (मध्यम) परियोजना बागली अन्तर्गत विशेष केन्द्रीय सहायता एवं संविधान के अनुच्छेद 275 (1) में खातेगांव विधान सभा क्षेत्रान्तर्गत कोई कार्य स्वीकृत न होने से जानकारी निरंक। (घ) प्रश्नांश ''ख'' में उल्लेखित योजनाओं में एकीकृत आदिवासी विकास (मध्यम) परियोजना बागली अंतर्गत खातेगांव विधान सभा क्षेत्र में वर्ष 2019-20 एवं 2020-21 में आदिवासी वर्ग के कृषकों के कोई प्रकरण लंबित नहीं होने से जानकारी निरंक।
अनुकम्पा नियुक्ति के प्रावधान
[स्कूल शिक्षा]
7. ( क्र. 1165 ) श्री संजय शर्मा : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वर्तमान में स्कूल शिक्षा विभाग के अंतर्गत कार्यरत प्राथमिक शिक्षक, माध्यमिक शिक्षक, उच्च माध्यमिक शिक्षक की मृत्यु होने पर परिवार के सदस्य को भृत्य पद पर अनुकम्पा नियुक्ति प्रदान किये जाने का प्रावधान है? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार, यदि हाँ, तो इन्हीं कर्मचारियों के सहायक अध्यापक, अध्यापक एवं वरिष्ठ अध्यापक पद पर रहते हुये मृत्यु होने पर उनके आश्रितों को भृत्य पद पर अनुकम्पा नियुक्ति की पात्रता क्यों नहीं है? ऐसी विसंगति क्यों है? (ग) क्या कर्मचारियों के परिवार के हित में अध्यापकों के आश्रितों को भृत्य पद पर अनुकम्पा नियुक्ति दिये जाने का प्रावधान किया जावेगा?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। (ख) दिनांक 01/07/2018 के पूर्व अध्यापक संवर्ग स्थानीय निकाय के नियत्रंणाधीन होने से भृत्य के पद पर अनुकंपा नियुक्ति की पात्रता नहीं है। (ग) जी नहीं। विभाग के आदेश दिनांक 01/02/2021 से केवल प्रयोगशाला शिक्षक के पद पर अध्यापक संवर्ग के लिये विशेष प्रावधान किया गया है।
मांझी जाति की उपजाति मछुआ में शामिल किया जाना
[जनजातीय कार्य]
8. ( क्र. 1781 ) श्री शैलेन्द्र जैन : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या अनुसूचित जनजातियों के लिये संचालित आदिम जाति अनुसंधान एवं विकास संस्था म.प्र. के माध्यम से मध्यप्रदेश शासन अनुसूचित जनजाति विभाग भोपाल द्वारा वर्ष 1964 में पुस्तक प्रकाशित की गई थी? (ख) क्या प्रश्नांश (क) में वर्णित पुस्तक के पृष्ठ क्र. 52 में मांझी जाति की उपजाति मछुआ, नाविक होने का लेख है? यदि हाँ, तो क्या शासन द्वारा अनुसूचित जनजाति की जारी सूची स.क्र. 29 पर उल्लेखित मांझी जाति की उपजाति मछुआ, नाविक का परिपत्र जारी कर दिया है? (ग) यदि हाँ, तो परिपत्र की प्रति उपलब्ध करायें? यदि नहीं, तो मांझी जाति की उपजाति मछुआ, नाविक को कब तक शामिल कर लिया जायेगा?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं (ग) प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
आयुक्त के आदेशों की अवहेलना
[स्कूल शिक्षा]
9. ( क्र. 1943 ) श्री कुँवर विक्रम सिंह : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या आयुक्त राज्य शिक्षा केन्द्र भोपाल म.प्र. के पत्र क्र./राशिके/आई.ई.डी./सी.एम.हेल्पलाईन/ 3708 भोपाल दिनांक 18.06.2018 एवं राज्य शिक्षा केन्द्र म.प्र. भेपाल के पत्र क्र./राशिके/आई.ई.डी./ 2019-3120 दिनांक 29.05.2019 में जिला छतरपुर अन्तर्गत कार्यरत लिपिक के द्वारा राज्य शिक्षा केन्द्र के आई.ई.डी. प्रभारी पर अनैतिक दबाव डालने के कारण अनुशासनात्मक कार्यवाही के निर्देश कलेक्टर जिला छतरपुर को दिये गये थे? (ख) यदि हाँ, तो क्या कलेक्टर जिला छतरपुर के द्वारा जिला नियुक्ति समिति द्वारा दोषी लिपिक के विरूद्ध कौन सी कार्यवाही का निर्णय लिया गया तथा निर्णय के आधार क्या-क्या थे? (ग) क्या दोषी लिपिक को कार्यालय कलेक्टर छतरपुर में अटैच किया गया? यदि हाँ, तो अटैच लिपिक के द्वारा शिकायत शाखा में डिप्टी कलेक्टर एवं डी.पी.सी. की सांठ-गांठ से प्रश्नांश (क) में कमिश्नर राज्य शिक्षा केन्द्र के आदेशों एवं नियुक्ति समिति के निर्णय के विरूद्ध डिप्टी कलेक्टर द्वारा आदेश जारी कराया गया है? यदि हाँ, तो क्या नियुक्ति समिति के निर्णय एवं कमिश्नर राज्य शिक्षा केन्द्र के निर्देशों को परिवर्तित करने का अधिकार डिप्टी कलेक्टर को है? शासन आदेश की प्रति उपलब्ध करायें। (घ) यदि नहीं, तो क्या कमिश्नर, राज्य शिक्षा केन्द्र के निर्देशों का पालन किया जावेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। (ख) उत्तरांश (क) एवं संबंधी जन की चरित्रवाली में विपरीत टीप अंकित होने के आधार पर सबंधीजन की संविदा वृद्धि नहीं करने का निर्णय लिया गया था। (ग) नहीं कार्यालय कलेक्टर छतरपुर में अटैच नहीं है। कार्यालय कलेक्टर जिला छतरपुर के पत्र क्र.-90/01/2021 छतरपुर दिनांक 02-03-2021 में दिये गये प्रश्नांश ''ग'' के उत्तर अनुसार श्री नीरज बादल संविदा लिपिक जिला शिक्षा केन्द्र छतरपुर द्वारा नोटिस क्र.-1700/सशिअ/2019/77 दिनांक 13-11-2019 के विरूद् प्रस्तुत अभ्यावेदन में उल्लेखित तथ्यों की जाँच कलेक्टर छतरपुर द्वार कराई गयी तथा जाँच में आये तथ्यो के आधार पर कलेक्टर के अनुमोदन अनुसार आदेश क्र.-131/शिकायत-1/2020 दिनांक 27-11-2020 जारी किया गया था। अत: शेष का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश (ग) के अनुक्रम में प्रश्न ही नहीं है।
पशु चिकित्सालय एवं औषधालय की जानकारी
[पशुपालन एवं डेयरी]
10. ( क्र. 2368 ) श्री देवेन्द्र सिंह पटेल : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रायसेन जिले में कहाँ-कहाँ पर पशु चिकित्सालय, पशु औषधालय तथा अन्य चिकित्सा सुविधा उपलब्ध है? उक्त स्थानों पर कौन-कौन से पद कब से रिक्त हैं तथा क्यों? उक्त रिक्त पदों की पूर्ति कब तक होगी? (ख) प्रश्नांश (क) के चिकित्सालयों के पास कितनी-कितनी भूमि है तथा उक्त भूमि पर किन-किन का कब से अतिक्रमण है? उक्त अतिक्रमण को हटाने के लिए तथा भूमि पर अतिक्रमण रोकने हेतु विभाग के अधिकारियों द्वारा क्या-क्या कार्यवाही की गई? (ग) रायसेन जिले में वर्ष 2018-19 से फरवरी 2021 तक किस-किस मद योजना में कितनी राशि प्राप्त हुई उक्त राशि से क्या-क्या कार्य करवाये गये एवं प्रश्नांश (क) के चिकित्सालयों के भवन की क्या स्थिति है? शासन द्वारा अस्पतालों में क्या-क्या सुविधायें दवाईयां दी जा रही है?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र- ''अ'' अनुसार। पदस्थापना निरंतर प्रक्रिया है। समय-सीमा बताना संभव नहीं है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब' अनुसार। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''स', ''द'' एवं ''ई'' अनुसार।
अशासकीय विद्यालयों का संचालन
[स्कूल शिक्षा]
11. ( क्र. 2369 ) श्री देवेन्द्र सिंह पटेल : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अशासकीय विद्यालयों में फीस, ड्रेस, पुस्तक क्रय एवं वाहन किराया वसूल करने के संबंध में शासन के क्या-क्या निर्देश है? उनकी प्रति दें तथा उक्त निर्देशों का जिलों में पालन हो, इस हेतु किस-किस अधिकारी की क्या-क्या जवाबदारी है? (ख) अशासकीय विद्यालयों में फीस नियंत्रण एवं किन-किन पुस्तकों से अध्यापन कार्य कराया जाये वाहन शुल्क का निर्धारण आदि के संबंध में विभाग द्वारा क्या-क्या कार्यवाही एवं प्रयास किये जा रहे है? पूर्ण विवरण दें। (ग) रायसेन जिले में संचालित अशासकीय विद्यालयों की सूची देवें। (घ) शिक्षा का अधिकार अधिनियम के तहत रायसेन जिले में किन-किन विद्यालयों में कितन-कितने छात्र/छात्राओं को शैक्षणिक सत्र 2018-19 से 2020-21 तक प्रवेश दिया गया तथा किस-किस विद्यालयों को कितनी-कितनी राशि का भुगतान किया तथा किन-किन की कितनी-कितनी राशि का भुगतान बकाया है तथा कब तक राशि का भुगतान होगा।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) हाई/हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक अनुसार। (ख) इस संबंध में विभाग द्वारा जारी निर्देश पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-एक में समाहित है। (ग) रायसेन जिले में संचालित कक्षा 1 से 8 तक के विद्यालयों की सूची पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार। हाई स्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-दो अनुसार। (घ) सत्र 2018-19 एवं 2019-20 में शिक्षा का अधिकार अधिनियम के अंतर्गत गैर अनुदान प्राप्त, मान्यता प्राप्त अशासकीय विद्यालयों में प्रवेशित छात्र/छात्राओं की जानकारी एवं विद्यालयों को प्रदाय की गयी राशि एवं बकाया राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र -'ब' अनुसार।
सामूहिक विवाह सम्मेलन
[सामाजिक न्याय एवं निःशक्तजन कल्याण]
12. ( क्र. 2502 ) श्री लखन घनघोरिया : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) जिला जबलपुर में आयोजित मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के अन्तर्गत कितने सामूहिक विवाह निकाह सम्मेलनों में कितने जोडों के विवाह सम्पन्न कराये गये कितने जोडों को राशि 51,000/- के हिसाब से दी गई? कितने हितग्राहियों को दी जाना शेष है? जबलपुर जिले में माह नवम्बर 2018 से मार्च 2020 तक की निकायवार जानकारी दें? (ख) प्रश्नांश (क) में शासकीय एवं सामाजिक व स्वयं सेवी संगठनों, संस्थाओं द्वारा आयोजित कितने-कितने सामूहिक विवाह व निकाह सम्मेलनों में कितने-कितने जोड़ों के विवाह सम्पन्न कराये गये? इनमें कितने जोड़ों को राशि 51 हजार के मान से वितरित की गई कितने हितग्राहियों को दी जाना शेष हैं? (ग) क्या शासन सामूहिक विवाह, निकाह सम्मेलनों में राशि 51,000/- के वितरण में की गई वित्तीय अनियमितता, फर्जीवाड़ा व राशि का वितरण न करने की जाँच कराकर दोषी अधिकारियों पर कार्यवाही करेगा? (घ) ऐसे कितने विवाह हो चुके हैं जिनकों राशि प्राप्त नहीं हुई है? उसका विवरण दें। बची राशि का भुगतान सरकार कब तक करेंगी?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जबलपुर जिले की 8 निकायों में मुख्यमंत्री कन्या विवाह/निकाह योजनान्तर्गत माह नवम्बर 2018 से मार्च 2020 तक विभिन्न तिथियों में सम्मेलन आयोजित कर 1543 कन्याओं के सामूहिक विवाह तथा 34 कन्याओं के निकाह संपन्न कराये गये है। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार। विवाहित जोडों को नियमानुसार 51,000/- के मान से सभी कन्या विवाह/निकाह योजना के 1577 जोडों को कुल राशि रूपये 80427000/- का भुगतान किया जा चुका है। किसी भी हितग्राही को राशि दी जाना शेष नहीं है। (ख) जबलपुर जिलान्तर्गत मुख्यमंत्री कन्या विवाह/निकाह योजना अंतर्गत सामाजिक व स्वयंसेवी संगठनों द्वारा विवाह सम्मेलन कराये जाने का कोई प्रावधान नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ग) जबलपुर जिला योजनान्तर्गत वित्तीय अनियमितता एवं फर्जीवाडा करने की कोई शिकायतें प्राप्त नहीं होने के कारण जाँच कराने एवं दोषियों के विरूद्ध कार्यवाही का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) समस्त पात्र कन्याओं को पात्रता अनुसार राशि का भुगतान किया जा चुका है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
किसानों की दूध की कीमत न बढ़ाने वालों पर कार्यवाही
[पशुपालन एवं डेयरी]
13. ( क्र. 3220 ) श्री सुभाष राम चरित्र : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सिंगरौली व रीवा जिले में सांची दुग्ध संध द्वारा कितने केन्द्र स्थापित कर दूध का संग्रहण किया जा रहा है कि जानकारी देते हुये बतावें कि प्रत्येक केन्द्रों से लगभग कितने लीटर दूध संग्रहित किया जा रहा है? (ख) प्रश्नांश (क) के दूध संग्रह केन्द्रों द्वारा दूध का बोनस व कीमत किन आधारों पर तय की जाकर किसानों को उनके दूध की कीमत का भुगतान किया जा रहा है कि जानकारी देते हुये बतावें कि क्या किसानों को बोनस 5 रू. प्रति लीटर देने का वचन पत्र का उल्लेख भी किया गया था जिसका पालन कर किसानों को बोनस का भुगतान नहीं किया जा रहा क्यों? (ग) प्रश्नांश (क) एवं (ख) के संदर्भ में किसानों के दूध की कीमत फैट के आधार पर तय कर शोषण किया जा रहा है, दूध, घी का मूल्य नहीं बढ़ाया जा रहा है जबकि सांची द्वारा जो दूध पैकेट में बंद कर बेचे जाते हैं उनकी कीमत किसानों के दूध की कीमत से कई गुना ज्यादा है क्यों इस पर क्या कार्यवाही करेंगे बतावें? (घ) प्रश्नांश (क) (ख) (ग) के तारतम्य में किसानों के दूध की कीमत बढ़ाये जाने के साथ 5 रू. प्रति लीटर बोनस के भुगतान के आदेश का क्रियान्वयन कराये जाने बाबत् निर्देश जारी करेंगे जिससे किसानों को उनके दूध का उचित मूल्य मिल सके अगर नहीं करेंगे तो क्यों बतावें?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) दूध के बोनस का निर्धारण सहकारी समिति के उप नियम में निहित प्रावधान के तहत तथा दूध की कीमत का निर्धारण दुग्ध उत्पादन लागत तथा स्थानीय बाजार में निजी व्यापारियों द्वारा भुगतान की जा रही प्रतिस्पर्धात्मक दरों के आधार पर किया जाता है। पूर्ववर्ती सरकार के वचन पत्र में रू 5/- प्रति लीटर बोनस देने का उल्लेख था। वित्तीय प्रावधान न होने से किसानों को बोनस वितरण नहीं किया जा रहा है। (ग) गुणवत्ता आधारित मूल्य भुगतान पद्धति में फैट की मात्रा के आधार पर भुगतान करने से किसानों को गुणवत्ता युक्त दूध प्रदाय करने पर उचित राशि प्राप्त होती है। दिनांक 06.12.2020 से दुग्ध क्रय दरों में वृद्धि कर रू 600/- प्रति किग्रा फैट की दर से दूध उत्पादकों से दूध क्रय किया जा रहा है। पैकेट के दूध का मूल्य, दुग्ध क्रय दर, संसाधन व्यय एवं अन्य व्ययों को जोड़ने के पश्चात् बाजार की स्थिति के अनुसार निर्धारित किया जाता है। घी का मूल्य बाजार में उपलब्ध अन्य ब्राण्ड्स के घी के समतुल्य है। (घ) दिनांक 06.12.2020 से दूध क्रय मूल्य बढ़ाया गया है। शेष उत्तरांश (ख) अनुसार।
दोषी के विरुद्ध कार्यवाही करना
[स्कूल शिक्षा]
14. ( क्र. 3237 ) श्री राकेश मावई : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) म.प्र. में कंटिंजेंट भृत्यों को नियमित करने के लिये स्कूल शिक्षा विभाग एवं शासन के क्या नियम निर्देश हैं? नियम निर्देशों की प्रति सहित जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) क्या प्रश्नांश (क) अनुसार नियमों का पालन शिक्षा अधिकारी मुरैना श्री सुभाष शर्मा ने दिनाक 11.11.2020 में कंटिंजेंट भृत्यों का नियमितीकरण करके विधानसभा उप निर्वाचन आचार संहिता के समय में किया है? यदि हाँ, तो जानकारी देवें। जिला शिक्षा अधिकारी मुरैना ने किन-किन कंटिंजेंट भृत्यों को नियमित किया है? (ग) क्या प्रश्नकर्ता सदस्य ने कंटिंजेंट भृत्यों को नियम विरुद्ध चुनाव आचार संहिता में नियमित करने की शिकायत प्रमुख सचिव, स्कूल शिक्षा विभाग भोपाल को अपने पत्र क्रं. 42/2020, दिनांक 17.12.2020 द्वारा की गई थी? यदि हाँ, तो उक्त पत्र पर क्या कार्यवाही की गई? कार्यवाही की प्रति सहित जानकारी देवें। (घ) प्रश्नांश (क) (ख) एवं (ग) अनुसार यदि हाँ, तो जिला शिक्षा अधिकारी मुरैना का मूल पद क्या है तथा उक्त अधिकारी के नियुक्ति दिनांक से प्रश्न दिनांक तक कितनी शिकायतें कब-कब प्राप्त हुई एवं उन शिकायतों पर क्या कार्यवाही हुई? प्राप्त शिकायतों एवं उन पर कृत कार्यवाही सहित जानकारी उपलब्ध करायें।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-01 अनुसार है। (ख) माननीय उच्च न्यायालय, ग्वालियर के डब्ल्यू.पी./6962/2015, डब्ल्यू.पी./5586/ 2016 में, डब्ल्यू पी/3856/2019, डब्ल्यू पी/4975/2019, डब्ल्यू पी/13935/2020 एवं डब्ल्यू पी/597/2019 में पारित निर्णय के पालन में कार्यवाही की गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-02 अनुसार है। (ग) जी हाँ। संभागीय संयुक्त संचालक, लोक शिक्षण संभाग ग्वालियर को जाँच कर जाँच प्रतिवेदन भेजने हेतु दिनांक 25/02/2021 एवं दिनांक 02/03/2021 को पत्र भेजे गए है। संभागीय संयुक्त संचालक, लोक शिक्षण संभाग ग्वालियर को भेजे गए पत्रों की प्रति पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-03 अनुसार है। (घ) जिला शिक्षा अधिकारी मुरैना का मूल पद उप संचालक है। जिला शिक्षा अधिकारी मुरैना के विरुद्ध प्राप्त शिकायतों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-04 अनुसार है एवं कृत कार्यवाही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-05 अनुसार है।
वन विभाग द्वारा कृषि भूमि पर बिना अधिग्रहण अधिसूचना के कब्जा
[वन]
15. ( क्र. 3353 ) श्री धर्मेन्द्र भावसिंह लोधी : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या वन विभाग निजी स्वामित्व की कृषि भूमि पर बिना अधिग्रहण अधिसूचना तथा बिना मुआवजा के भुगतान किये कब्जा कर, नाली खोदकर, पौधा रोपण कर सकता है? (ख) यदि नहीं, तो वन विभाग सिहोरा वन परिक्षेत्र गौरहा बीट द्वारा ग्राम भखरवारा पटवारी हल्का क्रमांक 47 तहसील बहोरीबंद जिला कटनी में निजी स्वामित्व की कृषि भूमि खसरा 1140, 1141, 1147, 1130, 1131, 1144 पर नाली खोद कर कब्ज़ा कर पौधा रोपण क्यों कर लिया गया है? (ग) वनविभाग निजी स्वामित्व की भूमि से कब्ज़ा हटायेगा या मुआवजा देगा? यदि हाँ, तो समयावधि बतायें। (घ) वन विभाग द्वारा कब्ज़ा कर नाली खोदने पौधा रोपण करने एवं कृषि कार्य से वंचित करने वाले अधिकारियों पर क्या कार्यवाही की गयी है? यदि नहीं, तो कब तक की जाएगी?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) निजी स्वामित्व की ऐसी भूमियां जो भारतीय वन अधिनियम, 1927 की धारा 4 में अधिसूचित है, उनमें अधिकारों के विनिश्चयन तथा वानिकी विकास दो पृथक-पृथक गतिविधियां हैं, ऐसी भूमियों पर पौधा रोपण हो सकता है। अधिकारों के विनिश्चयन उपरांत निर्णय अनुसार भूमि अधिग्रहण व मुआवजा भुगतान हो सकता है। (ख) वन विभाग, वन परिक्षेत्र सिहोरा के अंतर्गत गौरहा बीट, ग्राम भखरवारा, प.ह.नं. 47, तहसील बहोरीबंद, जिला कटनी के खसरा नंबर 1140, 1141, 1147, 1130, 1131, 1144, वनखण्ड क्रमांक-227 उदयपुरा में शामिल होकर वन भूमि है। वर्ष 1984 में वनखण्ड 227 उदयपुरा के कक्ष क्रमांक पी-7 की 10 हेक्टेयर वन भूमि पर वृक्षारोपण किया गया। वृक्षारोपण क्षेत्र में खसरा 1140, 1144 एवं 1147 शामिल है। इसी प्रकार वर्ष 2018-19 में वन खण्ड क्रमांक 227 के अंतर्गत खसरा क्रमांक 1130 एवं 1131 में रूटशूट का रोपण किया गया है। (ग) निजी स्वामित्व की भूमि पर कब्जा नहीं है अपितु उत्तरांश ''क'' अनुसार अधिकारों के विनिश्चयन अर्द्ध न्यायायिक की प्रक्रिया में है अत: समय-सीमा बताना संभव नहीं है। (घ) उत्तरांश (ग) के अनुसार प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
लेपटॉप योजना के तहत आवंटित राशि
[स्कूल शिक्षा]
16. ( क्र. 3367 ) श्री लखन घनघोरिया : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासन ने लोक शिक्षण संचालनालय म.प्र. भोपाल को लेपटॉप योजना के तहत कितनी-कितनी राशि आवंटित की है? कितनी-कितनी राशि के कितने लेपटॉप क्रय किये गये हैं। कितने लेपटॉप वितरित किये गये एवं कितने लेपटॉप का वितरण क्यों नहीं किया गया हैं? वर्ष 2018-19 से 2020-21 तक की जानकारी दें। (ख) प्रश्नांश (क) में किस-किस कम्पनी के किस दर पर कब, कहां से, कितनी राशि के कितने लेपटॉप क्रय किये गये हैं? कितने मेधावी छात्र/छात्राओं को कितने लेपटॉप का वितरण किया गया एवं कितने लेपटॉपों का वितरण कब से क्यों नहीं किया गया हैं? वर्षवार व जिलावार जानकारी दें। (ग) प्रश्नांश (क) में कितने छात्र/छात्राओं के खाते में राशि 25000/- के मान से जमा की गई एवं कितने छात्र/छात्राओं के खाते में कब से कितनी राशि जमा नहीं की गई हैं एवं क्यों? शासन ने लेपटॉप के क्रय में किये गये घोटाला व भ्रष्टाचार की जाँच कब किससे कराई हैं? इसमें दोषी किन-किन अधिकारियों पर कब, क्या कार्यवाही की गई हैं?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) लेपटॉप नाम से कोई योजना संचालित नहीं है। प्रतिभाशाली विद्यार्थी को प्रोत्साहन योजना संचालित है। योजना अंतर्गत माध्यमिक शिक्षा मण्डल म.प्र. द्वारा आयोजित कक्षा 12वीं की परीक्षा में प्रथम प्रयास में पात्रता आने पर लेपटॉप क्रय हेतु पात्र विद्यार्थियों के खाते में रूपये 25000-25000 की राशि अंतरित किये जाने का प्रावधान है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) किसी भी कम्पनी से लेपटॉप क्रय नहीं किये गये और न ही छात्र-छात्राओं को वितरित किये गये। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) प्रतिभाशाली विद्यार्थी प्रोत्साहन योजनान्तर्गत विद्यार्थियों को लेपटॉप क्रय किये जाने हेतु राशि रूपये 25000/- दी जाती है। शैक्षणिक सत्र 2018-19 की जानकारी निरंक है, सत्र 2019-20 में 40,507 पात्र विद्यार्थियों के खाते में रूपये 25000-25000 की राशि अंतरित की गई, सत्र 2020-21 हेतु राशि अंतरित की कार्यवाही कक्षा 12वीं के बोर्ड परीक्षा परिणाम के पश्चात की जावेगी। सत्र 2019-20 के 27 छात्र-छात्राओं के खाते त्रुटिपूर्ण होने के कारण योजना की राशि अंतरित नहीं की जा सकी है। उत्तरांश ''क'' एवं ''ख'' के प्रकाश में शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
आदिम जाति कल्याण विभाग अंतर्गत कटनी जिले में संचालित योजनाएं
[अनुसूचित जाति कल्याण]
17. ( क्र. 3459 ) श्री प्रणय प्रभात पाण्डेय : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) वर्तमान समय में कटनी जिला अंतर्गत अनुसूचित जाति एवं जनजाति वर्ग के लिये कौन-कौन सी योजनाएं संचालित हैं तथा इन संचालित योजनाओं से किस प्रकार से कौन-कौन से हितग्राही लाभांवित हो सकते हैं? योजनावार नियमों कि छायाप्रति देवें। (ख) वित्त वर्ष 2018-2019 से प्रश्न दिनांक तक प्रश्नांश (क) में उल्लेखित योजनाओं से लाभांवित बहोरीबंद विधानसभा के हितग्राहियों की संख्या ग्रामवार, वर्षवार देवें। (ग) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित योजनाओं का लाभ लेने हेतु कहाँ-कहाँ के कितने हितग्राहियों ने वित्त वर्ष 2019-20 सें प्रश्न दिनांक तक आवेदन प्रेषित किए तथा इन प्रेषित आवेदनों में से कितने आवेदनों का निराकरण कर दिया गया तथा कितने आवेदनों का निराकरण किन कारणों से अभी तक नहीं हो सका है। (घ) प्रश्नांश (क) में उल्लेखित वर्ग को सिंचाई सुविधा उपलब्ध कराने हेतु कृषि भूमि पर विद्युत कनेक्शन प्रदान करने तथा अन्य तरीकों से ऊर्जाकृत करने की योजनाएं क्या वर्तमान समय में बंद है? यदि हाँ, तो इसके क्या कारण हैं? इसे पुनः कब प्रारंभ किया जावेगा? यदि नहीं, तो इससे लाभांवित होने हेतु विधानसभा क्षेत्र के कहाँ-कहाँ के कितनों के कितने आवेदन लंबित हैं तथा उन्हें किस प्रकार से कब तक लाभांवित किया जावेगा? सूची देवें।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। योजनावार नियमों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'स' अनुसार है। (ग) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'द' अनुसार है। (घ) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। सिंचाई सुविधा हेतु कृषकों के कुओं तक विद्युत लाईन का विस्तार (पंपों का ऊर्जीकरण) का कार्य पत्र क्रमांक एफ 12-22/2016/4-25 दिनांक 10/02/2021 के द्वारा नियमों के परिप्रेक्ष्य में पात्रतानुसार स्वीकृति की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। प्राप्त आवेदन पत्रों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'इ' अनुसार है।
शिक्षकों की दक्षता परीक्षा की अनिर्वायता
[स्कूल शिक्षा]
18. ( क्र. 3463 ) श्री कमलेश जाटव : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या प्रदेश के हाई स्कूल एवं हायर सेकेण्ड्री स्कूलों के छात्रों का परीक्षा परिणाम यदि 40 प्रतिशत से कम होने पर हर वर्ष अपनी योग्यता साबित किये जाने हेतु संबंधित विषय के शिक्षकों के साथ-साथ उस शिक्षक को भी दक्षता परीक्षा दिया जाना अनिवार्य किया गया है, जिसने उक्त छात्र को 8वीं कक्षा में किसी अन्यत्र माध्यमिक विद्यालय में पढ़ाया था? (ख) प्रश्नांश (क) के अनुसार यदि हाँ, तो क्या विद्यालय प्रबंधन, जिला प्रशासन द्वारा आये दिन शिक्षकों को शिक्षा प्रदाय किये जाने के अलावा अन्य शासकीय दायित्वों जैसे (बी.एल.ओ. जनगणना, निर्वाचन) आदि दिये जाते है जिससे शिक्षण कार्य तो प्रभावित होता ही है, तथा उक्त कारणों के चलते पूर्व से कमजोर छात्र फेल हो जाते हैं, क्या परीक्षा परिणाम खराब होने पर ये अन्य सभी दोषी नहीं हैं? यदि हाँ, तो ऐसी स्थिति में दक्षता परीक्षण अनिवार्य किया जाना किस प्रकार से उचित है? (ग) आयुक्त, लोक शिक्षण संचालनालय, मध्यप्रदेश के पत्र क्र./समग्र/2021/155, भोपाल दिनांक 18 जनवरी, 2021 से क्या शिक्षकों को कॉर्पोरेट सेक्टर जैसा टारगेट बेस कार्य दिया गया है क्या शिक्षा प्रदाय किया जाना एवं सामग्री व माल बेचना एक सा ही कार्य है यदि नहीं, तो उक्त पत्र द्वारा दिये गये आदेशों तथा शिक्षकों की परीक्षा को तत्काल प्रभाव से समाप्त किया जावेगा? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं तो क्यों नहीं?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ सत्र 2019-20 में ऐसे हाई एवं हायर सेकेण्डरी विद्यालय के शिक्षक जिनके विषय का परीक्षा परिणाम 40 प्रतिशत अथवा कम रहा एवं ऐसे हाईस्कूल जिनका परीक्षा परिणाम 40 प्रतिशत अथवा कम रहा ऐसे विद्यालयों के कैचमेन्ट की माध्यमिक शालाओं के शिक्षकों के लिए दक्षता परीक्षा आयोजित की गई है। (ख) अपने मूल दायित्व शैक्षिक कार्य के साथ-साथ राष्ट्रीय महत्व के अन्य कार्यों जैसे जनगणना, निर्वाचन, मतदाता सूची का पुनरावलोकन इत्यादि में भी शिक्षकों की सेवाएं जिला प्रशासन द्वारा समय-समय पर अन्य संवर्ग के कर्मचारियों के साथ ली जाती है। शिक्षक दक्षता आंकलन परीक्षा के आयोजन का मूल उद्देश्य परीक्षा परिणाम कम होने के कारणों का विश्लेषण करना है ताकि शिक्षकों को पढ़ाने में आ रही समस्याओं का चिन्हांकन कर शिक्षकों को पठन-पाठन हेतु सक्षम बनाया जा सके। इस हेतु शिक्षकों को किस विषय वस्तु पर प्रशिक्षण की आवश्यकता है, का आंकलन भी किया जाता है। शिक्षक दक्षता परीक्षा में जिन शिक्षकों द्वारा निर्धारित स्तर प्राप्त नहीं किया गया उन शिक्षकों की दक्षता वृद्धि हेतु प्रशिक्षण दिया जा रहा है। (ग) जी हाँ। शालाओं को लक्ष्य तय करने के निर्देश दिये गये हैं। कोई भी विद्यार्थी शाला में फेल होने के लिए प्रवेश नहीं लेता। लक्ष्य निर्धारण से ही लक्ष्य को पूर्ण करने हेतु कार्य योजना बनती है तथा उसका क्रियान्वयन होता है। शेषांश का प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
अनुसूचित जाति कल्याण विभाग में रिक्त पदों की पूर्ति
[जनजातीय कार्य]
19. ( क्र. 3545 ) श्री शैलेन्द्र जैन : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या अनुसूचित जाति कल्याण विभाग के संभागीय कार्यालय सागर एवं जिला कार्यालय सागर में वर्तमान में प्रभारी नियुक्त है? यदि हाँ, तो क्या शासन सक्षम अधिकारियों की पदस्थापना करेगा तथा कब तक? (ख) अनुसूचित जाति कल्याण विभाग संभागीय कार्यालय सागर एवं जिला कार्यालय सागर में रिक्त पदों की पूर्ति तथा विभागीय अधिकारियों/कर्मचारियों की पदोन्नति, क्रमोन्नति का कोई प्रस्ताव शासन के समक्ष विचाराधीन है? यदि हाँ, तो वर्तमान तक क्या कार्यवाही प्रचलन में है? (ग) यदि नहीं, तो क्या शासन विभागीय व्यवस्थाओं के समुचित क्रियान्वयन हेतु रिक्त पदों की पूर्ति किये जाने पर विचार करेगा?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ। संभागीय उपायुक्त सागर के सेवानिवृत्त होने से प्रभारी अधिकारी की पदस्थापना स्थानीय व्यवस्था के तहत की गई है। जिला कार्यालय सागर में सहायक आयुक्त के पद पर पदस्थापना की जा चुकी है विभागीय अधिकारियों के पद रिक्त होने के कारण समय-सीमा बतलाया जाना संभव नहीं है। (ख) जी हाँ। पदोन्नति संबंधी न्यायालयीन प्रकरण माननीय उच्चतम न्यायालय में प्रचलित होने से समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। समयमान संबंधी कार्यवाही नियमानुसार की जाती है। (ग) शेष प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
उत्तर वन मंडल की संरक्षित भूमि
[वन]
20. ( क्र. 3706 ) श्री ब्रह्मा भलावी : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वनमण्डल के ग्राम टिकारी, झगड़िया, सिवनपाट, कटंगी, डुल्हारा एवं छतरपुर की कितनी भूमि संरक्षित वन सर्वे एवं वनखण्ड में शामिल की गई? कितनी भूमि किस आदेश क्रमांक दिनांक से किसे आवंटित की गई? कितनी भूमि 15 सितम्बर 1972 को डिनोटिफाईड की गई? कितनी भूमि 31/12/1976 तक के काबिजों के लिए डिनोटिफाईड की गई? (ख) संरक्षित वन सर्वे में शामिल ग्राम टिकारी, झगड़िया एवं डुल्हारा के खसरा नंबर एवं रकबे का उल्लेख 1972 में प्रकाशित डीनोटीफिकेशन की अधिसूचना में नहीं किए जाने का क्या कारण रहा है? ग्राम की समस्त भूमि के डीनोटीफिकेशन का उल्लेख किए जाने का क्या कारण रहा है? (ग) संरक्षित वन सर्वें में शामिल ग्राम टिकारी, झगड़िया एवं डुल्हारा की डिनोटिफाईड की गई समस्त भूमियों को वनमण्डल के द्वारा वर्तमान में वन संरक्षण कानून 1980 के दायरे में आने वाली वन भूमि किसके, किस दिनांक के आदेश से प्रतिवेदित किया जा रहा है? प्रति सहित बतावें।
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) मध्यप्रदेश शासन, वन विभाग के परिपत्र दिनांक 02.04.1971 में दिये गये निर्देशों के अनुसार कार्यवाही की गई है। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (ग) मध्यप्रदेश शासन, वन विभाग के परिपत्र क्रमांक/एफ-5/43/90/10-3/96 दिनांक 14.05.1996 के निर्देशानुसार ग्राम टिकारी, झगड़िया एवं डुल्हारा की डिनोटिफाईड की गई भूमियों को संरक्षित वन सर्वे में शामिल किया गया है। उक्त ग्रामों की भूमि पर माननीय सर्वोच्च न्यायालय के आदेश दिनांक 12.12.1996 में वन (संरक्षण) अधिनियम, 1980 के सन्दर्भ में पारिभाषित वन की परिभाषा अनुसार वन (संरक्षण) अधिनियम, 1980 के प्रावधान लागू होते हैं।
वर्किंग प्लान में शामिल भूमि
[वन]
21. ( क्र. 3707 ) श्री ब्रह्मा भलावी : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) बैतूल जिले में वन विभाग के वर्किंग प्लान में भा.व.अ. 1927 की धारा 29, धारा 4, धारा 27 एवं धारा 34अ के तहत अधिसूचित कितनी भूमि शामिल एवं है कितनी भूमि पर वन विभाग का कब्जा है? अधिसूचनावार पृथक-पृथक बतावें। (ख) धारा 29, धारा 4, धारा 27 एवं धारा 34अ में अधिसूचित भूमियों को वर्किंग प्लान में शामिल कर कब्जा किए जाने का अधिकार वन विभाग को भा.व.अ. 1927, वन संरक्षण कानून 1980, भू राजस्व संहिता 1959 एवं फॉरेस्ट मैनुअल की किस धारा एवं किस कंडिका में दिया है? (ग) वर्किंग प्लान में शामिल संरक्षित वन भूमि एवं नारंगी वन भूमि के नियंत्रण, प्रबंधन, विदोहन से संबंधित कौन-कौन सी कार्यवाही वन विभाग कर रहा है? इन कार्यवाहियों की भारत सरकार वन मंत्रालय नई दिल्ली से कब-कब अनुमति या स्वीकृति या अनुमोदन प्राप्त किया है प्रति सहित बतावें।
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) बैतूल जिले में वन विभाग के आधिपत्य की वर्किंग प्लान में शामिल भूमि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ख) भारतीय वन अधिनियम, 1927 वन (संरक्षण) अधिनियम, 1980 भू-राजस्व संहिता 1959 एवं फॉरेस्ट मैन्यूअल में कब्जा किये जाने का अधिकार नहीं है। (ग) वर्किंग प्लान में शामिल वन भूमियों के नियंत्रण, प्रबंधन एवं विदोहन से संबंधित कार्यवाही कार्य-आयोजना में उल्लेखित प्रावधानों के अनुसार की जा रही है। शेष प्रश्नांश की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है।
सुमावली में पशुपालन विभाग द्वारा संचालित योजनाएं
[पशुपालन एवं डेयरी]
22. ( क्र. 3743 ) श्री अजब सिंह कुशवाह : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) वर्ष 2018-19 एवं वर्ष 2019-20 में विधानसभा क्षेत्र सुमावली में कितनी गौशाला स्वीकृत थी? इनमें से कितनी संचालित हैं? कितनी असंचालित हैं? कितनी निर्माणाधीन हैं? किन-किन ग्राम पंचायतों में कितनों का निर्माण कार्य पूर्ण हो चुका हैं? जिन गौशालाओं का कार्य पूर्ण हो चुका है वह आज दिनांक तक शुरू क्यों नहीं की गई? (ख) विधानसभा क्षेत्र सुमावली में पशुपालन विभाग द्वारा वर्तमान में कौन-कौन सी योजनाएं चलायी जा रही हैं? इन योजनाओं द्वारा कितने हितग्राहियों को (क) अवधि में क्या-क्या लाभ दिया गया?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) विधानसभा क्षेत्र सुमावली में मनेरगा अंतर्गत वर्ष 2018-19 में काई गौशाला स्वीकृत नहीं थी एवं वर्ष 2019-20 में 04 गौशालाएं स्वीकृत हुई है, चारों गौशालाओं का निर्माण कार्य पूर्ण हो चुका है एवं प्रारंभ होकर वर्तमान में संचालित हैं। ग्राम पंचायत नायकपुरा गौशाला में 56, ग्राम पंचायत विण्डवाक्यारी गौशाला में 68, ग्राम पंचायत मैना बसई गौशाला में 50 तथा ग्राम पंचायत खाण्डोली गौशाला में 15 गौवंश उपलब्ध है। (ख) जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार।
प्राचार्य को राशि व्यय करने का अधिकार
[स्कूल शिक्षा]
23. ( क्र. 3802 ) श्री पाँचीलाल मेड़ा : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) शासकीय कन्या उ.मा.वि.लहार जिला भिण्ड में शिक्षण सत्र 2016-17, 2017-18, 2018-19 एवं 2020-2021 तक छात्राओं से प्राप्त शुल्क एवं शासन से प्राप्त अनुदान की राशि कितनी-कितनी प्राप्त हुई? मदवार एवं वर्षवार बताएं? (ख) उक्त प्रश्नांश के परिप्रेक्ष्य में उक्त अवधि में प्राचार्य द्वारा कितनी-कितनी राशि किस-किस मद/कार्य में व्यय की गई? (ग) प्राचार्य को कितनी राशि व्यय करने के अधिकार हैं एवं उनके द्वारा उनके अधिकार क्षेत्र से बाहर राशि व्यय करने हेतु क्या अपने वरिष्ठ अधिकारियों से अनुमोदन लिया गया? यदि नहीं, तो क्यों? प्राचार्य द्वारा व्यय किए जाने के अधिकार संबंधी आदेश की प्रति उपलब्ध कराएं? (घ) उपरोक्त प्रश्नांश (ख) के परिप्रेक्ष्य में क्या प्राचार्य द्वारा भण्डार क्रय नियम का पालन किया गया? (ड.) क्या प्राचार्य द्वारा क्रय की गई सामग्री एवं कराए गए कार्यों हेतु वरिष्ठ कार्यालय से अनुमति प्राप्त कर निविदा आमंत्रित की गई है? यदि हाँ, तो किस-किस समाचार पत्र में कब-कब निविदा आमंत्रित की गई? (च) यदि प्राचार्य द्वारा अपने अधिकार क्षेत्र के विरुद्ध एवं भण्डार क्रय नियमों का पालन न कर मनमाने ढंग से राशि व्यय की गई तो क्या इसकी जाँच कराकर संबंधित प्राचार्य के विरुद्ध कार्यवाही की जाएगी? यदि नहीं, तो क्यों?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) एवं (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार। (ग) प्राचार्य को व्यय के अधिकार की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 एवं 3 अनुसार है। शेषांश प्रश्नांकित विद्यालय का वर्षवार मदवार राशि के व्यय की वित्तीय जाँच हेतु जिला शिक्षा अधिकारी जिला भिण्ड द्वारा दिनांक 06.03.2021 को दल गठित किया गया है। (घ) उत्तरांश 'ग' अनुसार जाँच के निष्कर्ष पर निर्भर करेगा। (ड.) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (च) उत्तरांश 'ग' अनुसार, जाँच के निष्कर्ष पर निर्भर करेगा।
जबलपुर में इनफर्टिलिटी लैब का निर्माण
[पशुपालन एवं डेयरी]
24. ( क्र. 3870 ) श्री सुशील कुमार तिवारी : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या दुधारू पशुओं की इनफर्टिलिटी की समस्या निदान के लिये वेटनरी अस्पताल जबलपुर में म.प्र. की पहली लैब बनेगी? (ख) क्या लैब उपकरणों की खरीदी मंडी बोर्ड के अधिकारियों द्वारा की जावेगी? (ग) यदि हाँ, तो क्यों? (घ) क्या तकनीकी दृष्टि से पशुपालन विभाग के विशेषज्ञ अधिकारियों द्वारा खरीदी कराना उचित नहीं है?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी हाँ। (ख) जी नहीं। (ग) प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) तकनीकी दृष्टि से पशुपालन विभाग के विशेषज्ञ अधिकारियों द्वारा खरीदी कराना उचित है।
निर्माण कार्यों की निविदा आमंत्रित के नियम
[जनजातीय कार्य]
25. ( क्र. 3885 ) श्री निलय विनोद डागा : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या बैतूल जिले में विभाग द्वारा निर्माण कार्य हेतु क्या ऑनलाईन/ऑफलाईन निविदाएं आमंत्रित की जाती है? यदि हाँ, तो संपूर्ण प्रक्रिया नियम सहित उपलब्ध करावें। (ख) निविदाओं के नियम क्या सदैव एक जैसे ही होते हैं या हर बार उसमें किसी प्रकार का कोई परिवर्तन किया जाता है? ऑनलाईन/ऑफलाईन निविदाओं की पृथक-पृथक जानकारी नियम सहित देवें। (ग) वर्तमान में निर्माण कार्य हेतु विभाग ने क्या कोई निविदाएं बुलाई हैं? क्या निविदा में जीएसटी के चालान मांगे गए हैं? क्या इसे मांगे जाने हेतु शासन ने कोई प्रावधान लागू किया है? क्या अन्य विभागों से संबंधित निर्माण कार्यों की निविदाओं में भी इस दस्तावेज को मांगा जाता है? यदि हाँ, तो नियम कानून/प्रावधानों की प्रति उपलब्ध करावें यदि नहीं, तो जीएसटी के चालान मांगे जाने का औचित्य बतावें। (घ) प्रश्नांश (ग) अनुसार यदि जीएसटी चालान को मांगे जाने का कोई प्रावधान नहीं है तब क्या किसी को लाभ पहुंचाने के उद्देश्य से विभाग द्वारा इस दस्तावेज की मांग की है? क्या विभाग द्वारा नियम कानूनों का स्वनिर्धारण कर दस्तावेजों की मांग की जाती है? क्या निविदाएं पुनः आमंत्रित कर संबंधित पर कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो क्या कार्यवाही की जावेगी एवं कब?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जी हाँ। विभाग द्वारा केवल ऑनलाईन निविदायें आमंत्रित की जाती हैं। वित्त विभाग के आदेश क्रमांक एफ-137/2845/2019/ नियम/चार/दिनांक 17.01.2020 के क्रमांक 20 तथा विभाग द्वारा अनुमोदित निविदा प्रारूप अनुसार निविदा की कार्यवाही की जाती है, प्रक्रिया एवं नियम की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ख) कार्य की लागत, प्रकृति तथा नियम अनुसार कार्य की निविदा की कार्यवाही विभाग द्वारा की जाती है। प्रश्नांश की शेष जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट अनुसार है। (ग) जी नहीं। प्रश्नांश का शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (घ) प्रश्नांश ''ग'' के उत्तरांश अनुसार प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मॉडल स्कूलों में शिक्षकों की पदपूर्ति
[स्कूल शिक्षा]
26. ( क्र. 3934 ) श्रीमती झूमा डॉ. ध्यानसिंह सोलंकी : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या भीकनगांव विधानसभा के क्षेत्र अंतर्गत वर्तमान में कितने मॉडल स्कूल संचालित हैं तथा कहाँ-कहाँ पर स्थित हैं? (ख) स्वीकृत पद की तुलना में कितने पदों पर वर्तमान में शिक्षक पदस्थ हैं? कितने रिक्त हैं तथा कितने अन्य स्थान पर अटैच हैं तथा अटैच शिक्षक के नाम मूल पद स्थापना एवं अटैच स्थान सहित जानकारी उपलब्ध करावें? (ग) कब तक सम्पूर्ण पदों पर शिक्षकों की पद पूर्ति की जावेगी?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) प्रश्नाधीन विधान सभा क्षेत्र अन्तर्गत 01 मॉडल स्कूल शासकीय मॉडल स्कूल झिरन्या में संचालित है। (ख) प्रश्नाधीन स्कूल में स्वीकृत 14 शैक्षिक पदों के विरूद्ध सभी पद रिक्त है। वर्तमान में 02 शिक्षक स्थानीय स्तर पर विद्यालय में अध्यापन करा रहे है। शेष शैक्षणिक व्यवस्था अतिथि शिक्षकों से की जाती है। प्रश्नाधीन मॉडल स्कूल से कोई शिक्षक अन्यत्र अटैच नहीं है। (ग) नवीन शैक्षणिक संवर्ग में भर्ती प्रक्रिया प्रचलित है। समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है।
दिव्यांग बच्चों के शिक्षण में गुणवत्ता विकास
[स्कूल शिक्षा]
27. ( क्र. 3950 ) श्री नीलांशु चतुर्वेदी : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या राज्य शिक्षा केन्द्र स्कूल शिक्षा विभाग में 5 जून 2018 की नीति के अनुसार 90% वेतनमान का लाभ संविदा कर्मचारियों को दिया गया है? यदि हाँ, तो जानकारी उपलब्ध करायें। (ख) क्या माननीय मुख्यमंत्री जी की घोषणा क्रमांक 4044 नि:शक्तजन महापंचायत दिनांक 29 अप्रैल, 2008 के अनुसार दिव्यांग बच्चों के हितार्थ सेल गठन की कार्यवाही की गई है? यदि हाँ, तो उक्त सेल के सभी सदस्यों की योग्यता एवं सेल से कितने दिव्यांग बच्चों को लाभान्वित किया गया है? (ग) क्या स्कूल शिक्षा विभाग मध्यप्रदेश शासन में नई शिक्षा नीति 2020 को प्रभावी तौर पर लागू करने एवं स्कूल शिक्षा की गुणवत्ता विकास हेतु सुझाव मार्गदर्शन के लिए टास्क फोर्स का गठन किया गया है? यदि हाँ, तो दिव्यांग बच्चों के शिक्षा गुणवत्ता विकास हेतु कितने विशेष शिक्षकों को टास्क फोर्स में शामिल किया गया है? (घ) क्या राज्य शिक्षा केन्द्र स्कूल शिक्षा विभाग के द्वारा सतना जिले के शिक्षकों को दिव्यांग बच्चों की शिक्षण व्यवस्था हेतु विगत 5 वर्ष में कोई प्रशिक्षण दिया गया है? यदि हाँ, तो इन प्रशिक्षण प्राप्त शिक्षकों की प्रशिक्षण पूर्व पदस्थ शाला का नाम, प्रशिक्षण उपरान्त पदस्थ की शाला का नाम, वर्तमान पदस्थापना एवं उक्त शालाओं में अध्ययनरत दिव्यांग बच्चों की दिव्यांगवार जानकारी देवें।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी नहीं। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी हाँ। सेल गठन के संबंध में जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। कुल 101336 विद्यार्थी लाभान्वित हो रहे है। (ग) जी हाँ। गठित टास्क फोर्स में विभिन्न क्षेत्रों के शिक्षाविद, सामाजिक कार्यकर्ता, कैरियर काउंसलर, विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञ, शासकीय/अशासकीय सेवाओं से सेवानिवृत्त अधिकारी एवं विभागीय अधिकारियों को सम्मिलित किया गया है। (घ) जी हाँ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है।
जनजाति विकास योजना की जानकारी
[जनजातीय कार्य]
28. ( क्र. 3961 ) श्री बैजनाथ कुशवाह : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) जनजातीय कार्य विभाग द्वारा बस्ती विकास योजना एवं विद्युतीकरण योजनांतर्गत कार्य कराये जाने एवं क्रियान्वयन हेतु क्या-क्या निर्देशि का प्रचलन में है, की फोटो प्रति सहित जानकारी दी जावे। (ख) प्रश्नांश (क) के प्रकाश में वित्तीय वर्ष 2017 से जनवरी, 2021 तक कितनी राशि प्राप्त हुई? जिलावार बतावें। प्राप्त राशि में से जिला मुरैना में किन-किन विधान सभा क्षेत्रों को प्रश्नांश (क) में उल्लेखित कार्यों में व्यय की जानकारी विधानसभा क्षेत्रवार दी जावे। जानकारी में हितग्राही का नाम, पता, प्रदाय राशि, कार्य का विवरण, वर्ष दिनांक, मांग संख्या, लेखा शीर्ष आदि सहित वर्षवार दी जावें।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''अ'' अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र ''ब'' अनुसार है।
अंत्याव्यवसायी बैंकों द्वारा ऋण एवं अनुदान
[अनुसूचित जाति कल्याण]
29. ( क्र. 3962 ) श्री बैजनाथ कुशवाह : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) विभाग द्वारा अंत्याव्यवसायी बैंकों द्वारा ऋण एवं अनुदान देने के क्या-क्या नियम प्रक्रिया निर्मित हैं व नियम प्रक्रियाओं की फोटोकॉपी दी जावे। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में जिला मुरैना में कितने हितग्राहियों को ऋण एवं अनुदान अप्रैल, 2017 से फरवरी, 2021 तक दिया गया, जानकारी हितग्राही का नाम, पता, कार्य का विवरण, देयक राशि, वर्ष दिनांक, मांग संख्या, लेखा शीर्ष एवं उपशीर्ष आदि सहित दी जावे।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) निगम द्वारा जिला स्तर पर जिला अंत्याव्यवसायी समिति के माध्यम से संचालित योजनाओं में बैंकों से ऋण एवं अनुदान देने के नियम है। नियम प्रक्रियाओं की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। (ख) प्रश्नांश (क) के संदर्भ में जिला मुरैना में अप्रैल 2017 से फरवरी 2021 तक 538 हितग्राहियों को विभिन्न बैंकों से ऋण एवं विभाग से अनुदान उपलब्ध कराया गया। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'ब' अनुसार है।
अधिकार विहीन कार्य करने पर दण्डात्मक कार्यवाही
[स्कूल शिक्षा]
30. ( क्र. 4011 ) श्री विजयराघवेन्द्र सिंह : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या किसी जिले के विभागीय अधिकारी को अन्य उच्च प्रथम श्रेणी अधिकारिता वाले संभागीय कार्यालय में प्रशासकीय एवं वित्तीय अधिकारी प्रदत्त करने का अधिकार प्रशासकीय विभाग को ही है? (ख) क्या श्री नीरव दीक्षित प्राचार्य डाईट सतना को संचालनालय के आदेश क्र. स्था-1/राज/वी/59/2020/1167 दिनांक 04.12.2020 के द्वारा अपने कार्य के साथ-साथ संयुक्त संचालक लोक शिक्षण रीवा संभाग रीवा का प्रभार अस्थाई रूप से सौंपा गया था परंतु प्रशासकीय विभाग द्वारा श्री दीक्षित को अब तक प्रशासकीय एवं वित्तीय अधिकार प्रदान नहीं किया गया? (ग) संयुक्त संचालक लोक शिक्षण रीवा संभाग रीवा का प्रशासकीय एवं वित्तीय अधिकार न होते हुए भी श्री नीरव दीक्षित द्वारा काम चालू प्रभार में रहते हुए कितनी विशेष/अनुकंपा नियुक्तियां एवं वित्तीय आहरण संवितरण किया गया? (घ) क्या बिना प्रशासकीय एवं वित्तीय अधिकार प्राप्त हुए प्रश्नांश (ग) के अनुरूप श्री नीरव दीक्षित द्वारा नियम विरूद्ध की गई विशेष/अनुकंपा नियुक्तियों एवं वित्तीय आहरण संवितरण निरस्त किए जायेगें एवं बिना सक्षम अधिकार प्राप्त हुए शासन से धोखाधड़ी करते हुये अधिकारों का दुरूपयोग करने के आरोप में उन्हें तत्काल निलंबित कर विभागीय जाँच संस्थित की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। जिस पद का प्रभार सौंपा गया है उसके समस्त अधिकार उन्हें पृथक से अधिकार सौंपे जाने की आवश्यकता नहीं है। (ग) उत्तरांश 'ख' के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता। (घ) उत्तरांश 'ख' एवं 'ग' के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
छात्रवृत्ति की राशि का गबन
[स्कूल शिक्षा]
31. ( क्र. 4012 ) श्री विजयराघवेन्द्र सिंह : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) समेकित छात्रवृत्ति योजना अन्तर्गत वर्ष 2016-17 से 2020-21 तक क्या कटनी जिले के ढीमरखेडा विकासखण्ड के अंतर्गत आदिम जाति कल्याण विभाग के अंतर्गत अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के विद्यार्थियों को दी जाने वाली छात्रवृत्ति प्रत्येक संकुल में अलग-अलग खाता खोल कर जमा किए जाने के निर्देश दिए गए थे किन्तु ढीमरखेडा संकुल ने एक ही खाता में राशि जमा किया? (ख) प्रश्नांश (क) यदि हाँ, तो उक्त संकुल में छात्रवृत्ति की कितनी राशि का गबन (घोटाला) हुआ? उक्त हुए गबन की पुलिस थाने में प्राथमिकी दर्ज अभी तक क्यों नहीं कराई गई? कब कराई जायेगी? (ग) प्रश्नांश (क), (ख) के परिप्रेक्ष्य में गबनकर्ताओं को कौन-कौन अधिकारी बचा रहे हैं और इस प्रकरण में कौन-कौन अधिकारी/कर्मचारी प्रथम दृष्टया दोषी पाए गए है? नाम, पदनाम सहित बताएं। (घ) क्या जिला कटनी में इस तरह के और गबन प्रकरण विगत पांच वर्षों हुए हैं तो उन हुए गबन प्रकरणों में गबनकर्ताओं के विरूद्ध क्या कार्यवाही की गई?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी नहीं। (ख) एवं (ग) उत्तरांश ''क'' के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) जी नहीं। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
सीएम राइस योजना
[स्कूल शिक्षा]
32. ( क्र. 4036 ) श्री निलय विनोद डागा : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रदेश में सीएम राइस योजना कब से लागू की गई है? इसमें किस-किस शाला को लिए जाने का प्रावधान है तथा इन शालाओं में क्या-क्या सुविधा दी जावेगी? नियमों एवं आदेशों की प्रति उपलब्ध कराएं। क्या प्रदेश में इस प्रकार की शालाओं का कहीं सफल संचालन हुआ है? यदि हाँ, तो कहाँ-कहाँ? स्थान सहित पूरी जानकारी देवें। (ख) बैतूल विधानसभा क्षेत्र की किस-किस शाला को उपरोक्त योजना में लिया गया है तथा इन शालाओं को उपलब्ध कराई जाने वाली सुविधाओं में से कौन-कौनसी सुविधा उपलब्ध करा दी गई है एवं कौन-कौनसी सुविधा उपलब्ध कराया जाना शेष है? (ग) बैतूल विधानसभा क्षेत्र की इन शालाओं में बच्चों की सुरक्षा की क्या व्यवस्था की जानी है एवं क्या व्यवस्था की गई है? साथ ही बच्चों के आवागमन हेतु उपयोग की जाने वाली बसों तथा वाहनों का संचालन संधारण किस प्रकार किया जाएगा तथा इन शालाओं के संचालन की क्या प्रक्रिया होगी? (घ) इन शालाओं के संचालन से कौन-कौन सी शालाएं प्रभावित होगी तथा किस-किस शाला को बंद किया जाना प्रस्तावित है या बंद कर दिया गया है या भविष्य में बंद हो जावेगी?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) से (घ) सी.एम. राइस सर्व सुविधा सम्पन्न स्कूल खोलने की योजना की स्वीकृति की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है। शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
आदिवासियों को भरोला जाति प्रमाण-पत्र का प्रदाय
[जनजातीय कार्य]
33. ( क्र. 4051 ) श्री आशीष गोविंद शर्मा : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) देवास जिले की खातेगांव तहसील में ग्राम पंचायत विक्रमपुर, सागौन्या के अंतर्गत अनुसूचित जन जाति के लगभग 100 से अधिक परिवार निवासरत हैं जो अपनी आजीविका पत्थर पर छैनी हथौंडे से टंकन करके सिलबट्टा, खरल, गेहूँ पीसने की चक्की आदि बनाने का काम करते हैं, इस कारण इन्हें स्थानीय भाषा/बोली में (टाकियां) अथवा घट्टीया कहकर संबोधित किया जाता है। (ख) यह कि समूचे म.प्र. में इनके रिश्तेदारों को भरोला जाति कहा जाता है एवं अनुसूचित जनजाति की योजनाओं का लाभ दिया जाता है। देवास जिले की अन्य तहसीलों में भी इनके समाज को अनुसूचित जनजाति का दर्जा प्राप्त है? (ग) क्या विभाग खातेगांव तहसील के निवासरत (भीमताल)/टांडा गांव के निवासियों को (भरोला) जनजाति का प्रमाण-पत्र दिये जाने हेतु यहां के नागरिकों की जाति निर्धारण संबंधी कार्यवाही अतिशीघ्र पूर्ण करेगा? (घ) क्या विभाग अतिशीघ्र इन लोगों को भी अनुसूचित जनजाति का प्रमाण-पत्र देने हेतु SDM खातेगांव को निर्देशित करेगा?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) प्रश्नांश में कोई जानकारी अपेक्षित नहीं। (ख) भारत सरकार द्वारा मध्यप्रदेश राज्य के लिये जारी अनुसूचित जनजाति सूची में भरोला जाति नाम अधिसूचित नहीं है। (ग) एवं (घ) प्रश्नांश (ख ) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न ही उपस्थित नहीं होता।
मूक बधिर विद्यालयों में शिक्षकों की निर्धारित योग्यता
[सामाजिक न्याय एवं निःशक्तजन कल्याण]
34. ( क्र. 4053 ) श्री केदारनाथ शुक्ल : क्या पशुपालन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) सामाजिक न्याय विभाग अंतर्गत संचालित मूक बधिर विद्यालय में कार्यरत शिक्षकों हेतु निर्धारित योग्यता D.Ed. (H.I.) निर्धारित थी और इसी अनुसार लगभग 50 शिक्षकों (श्रवण बाधितार्थ) की भर्ती की गई है जबकि वर्तमान में इस पद हेतु निर्धारित योग्यता B.Ed. (H.I) कर दी है जिसके कारण D.Ed. (H.I) योग्यताधारी बेरोजगार घूम रहे हैं। इनको कहां नियुक्त किया जायेगा? (ख) भारत सरकार एवं प्रदेश सरकार के सहयोग से प्रदेश में D.Ed. (H.I.) के लगभग 30 कॉलेज संचालित हैं, जिसमें से लगभग 800 छात्र प्रतिवर्ष D.Ed. (H.I.) का डिप्लोमा प्राप्त कर रहे हैं। साथ ही प्रदेश सरकार द्वारा प्रति छात्र 80000-00 रू. स्कालरशिप भी दी जा रही है। अगर D.Ed. (H.I.) डिप्लोमाधारियों की आवश्यकता नहीं है तो स्पेशल कालेज क्यों चलाये जा रहें हैं और स्कालरशिप क्यों दी जा रही हैं? (ग) भारत सरकार द्वारा B.Ed. (H.I.) योग्यताधारियों को व्याख्याता (श्रवण बाधितार्थ) पद में नियुक्त करनें एवं D.Ed. (H.I.) डिप्लोमाधारियों को शिक्षक (श्रवण बाधितार्थ) हेतु मापदण्ड निर्धारित किया गया है। जबकि सामाजिक न्याय विभाग द्वारा भर्ती नियम में मनमाना परिवर्तन कर D.Ed. (H.I.) को षड्यंत्र पूर्वक हटा दिया गया है, इसके लिये कौन दोषी हैं और कब तक D.Ed. (H.I.) को भर्ती नियम में जोड़ा जायेगा?
पशुपालन मंत्री ( श्री प्रेमसिंह पटेल ) : (क) जी नहीं। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी हाँ। भारतीय पुर्नवास परिषद् द्वारा मान्यता प्राप्त संस्थान से विशेष शिक्षा के पाठ्यक्रम संचालित किये जा रहे है। प्राथमिक स्तर की शिक्षा के लिए डी.एड. अर्हताधारी की आवश्यकता होती है। (ग) व्याख्याता पद के लिए बी.एड. योग्यता निर्धारित है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
मंत्री परिषद् के अधिकार क्षेत्र
[स्कूल शिक्षा]
35. ( क्र. 4097 ) सुश्री हिना लिखीराम कावरे : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि अध्यापक शिक्षक संवर्ग के आश्रित को अनुकम्पा नियुक्ति देने हेतु अनुकम्पा नियुक्ति के नियमों में पात्रता परीक्षा तथा बी.एड/डी.एड की अनिवार्यता को शिथिल करने के अधिकार क्या राज्य मंत्री परिषद् को है?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : जी नहीं।
आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय आवंटित सीटों से अधिक नामांकन
[चिकित्सा शिक्षा]
36. ( क्र. 4153 ) श्री
विनय सक्सेना
: क्या
चिकित्सा
शिक्षा
मंत्री महोदय
यह बताने की
कृपा करेंगे
कि (क) क्या
प्रवेशित
वर्ष 2017-2018
एवं 2018-19
में बी.एस.सी.
नर्सिंग, एम.एस.सी.
नर्सिंग व
पोस्ट बेसिक
बी.एस.सी. पाठ्यक्रमों
की विभिन्न
महाविद्यालयों
को नर्सिंग
कौंसिल
द्वारा
आवंटित सीट
संख्या से अधिक
सीटों पर
नामांकन
म.प्र.
आयुर्विज्ञान
विश्वविद्यालय
द्वारा किये
गये थे? (ख) प्रश्नांश
(क) के
परिप्रेक्ष्य
में नर्सिंग
कौंसिल द्वारा
निर्धारित
सीटों से अधिक
सीटों पर किन-किन
महाविद्यालय
के, किन-किन
छात्रों का
नामांकन
म.प्र.
आयुर्विज्ञान
विश्वविद्यालय
द्वारा किया
गया था? छात्रों
के नाम, नामांकन
क्रमांक, नामांकन
दिनांक सहित
सूची देवें। (ग) प्रश्नांश
(क) के
परिप्रेक्ष्य
में क्या
म.प्र.
आयुर्विज्ञान
विश्वविद्यालय
की कार्यपरिषद्
द्वारा
विभिन्न
सम्बद्ध
महाविद्यालयों
की नर्सिंग
कौंसिल से
आवंटित सीटों
में वृद्धि की
गयी थी? यदि
हाँ, तो
निर्णय की
प्रति उपलब्ध
करावें। (घ) क्या
नर्सिंग
कौंसिल से
आवंटित सीटों
में वृद्धि
करने हेतु
म.प्र.
आयुर्विज्ञान
विश्व विद्यालय
द्वारा
नर्सिंग
कौंसिल की
अनुमति ली गयी
थी? यदि
हाँ, तो
दस्तावेज
देवें। यदि
नहीं, तो
क्या नर्सिंग
कौंसिल की
अनुमति के
बिना
महाविद्यालय
की सीटें बढ़ाई
जा सकती हैं? (ङ) उक्त
अवधि में
म.प्र.
आयुर्विज्ञान
विश्वविद्यालय
की सम्बद्धता
शाखा एवं
नामांकन शाखा
का प्रभार
किस-किस
अधिकारी के
पास था? क्या
उन पर शासन
द्वारा कोई
कार्यवाही की
जावेगी?
चिकित्सा
शिक्षा
मंत्री ( श्री
विश्वास
सारंग ) : (क)
जी
हाँ। वर्ष 2017-18 में तीन
नर्सिंग
महाविद्यालयों
द्वारा बी.एस.सी
नर्सिंग एवं
पोस्ट बेसिक
बी.एस.सी
पाठ्यक्रमों
की नर्सिंग
कौंसिल
द्वारा
आवंटित सीट
संख्या से
अधिक सीटों पर
नामांकन किये
गये थे। जानकारी
पुस्तकालय
में रखे
परिशिष्ट के
प्रपत्र-1 अनुसार है।
वर्ष 2018-19
में ऐसा कोई
प्रकरण नहीं है।
(ख) प्रश्नांश
(क) के
परिप्रेक्ष्य
में
निर्धारित
सीटों से अधिक
सीटों पर आर्युविज्ञान
विश्वविद्यालय
द्वारा किये
गये नामांकन
की जानकारी
पुस्तकालय
में रखे
परिशिष्ट के
प्रपत्र-2 अनुसार है।
(ग) जी
नहीं। शेष
प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता। (घ) जी
नहीं। शेष
प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता। जी नहीं।
(ड.) उक्त
अवधि में श्री
सुनील खरे, उप कुल
सचिव के पास
संबद्धता
शाखा का
प्रभार एवं
डॉ. तृप्ति
गुप्ता, ओ.एस.डी.
के पास
नामांकन शाखा
का प्रभार था।
महाविद्यालय
द्वारा अधिक
संख्या में
किये गये समस्त
विद्यार्थियों
के नामांकन पुस्तकालय
में रखे
परिशिष्ट के
प्रपत्र-2 अनुसार निरस्त
किये गये है। अत:
कार्यवाही का
प्रश्न
उपस्थित नहीं
होता।
आदिवासी क्षेत्रों से पलायन रोकने के उपाय
[जनजातीय कार्य]
37. ( क्र. 4177 ) डॉ. हिरालाल अलावा : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) क्या आदिवासी बहुल क्षेत्रों से प्रतिवर्ष बड़ी संख्या में लोग पलायन करते हैं? पलायन रोकने के लिए शासन द्वारा क्या प्रक्रिया अपनाई जा रही है? (ख) आदिवासी क्षेत्रों से प्रतिवर्ष पलायन होने के क्या कारण हैं? पलायन के कारणों की जाँच करने एवं रोकने के लिए उपयुक्त हस्तक्षेपकारी उपायों की सिफारिश हेतु शासन द्वारा कोई समिति गठित की गई? (1) यदि हाँ, तो समिति द्वारा प्रस्तुत रिपोर्ट का विवरण उपलब्ध कराएं। रिपोर्ट पर शासन द्वारा की गई कार्यवाही का ब्यौरा दें। (2) यदि नहीं, तो विधिसम्मत कारण बताएं। कब तक समिति गठित की जाएगी? क्या शासन आदिवासी बहुल क्षेत्रों से पलायन नहीं रोकना चाहता है? (ग) क्या पांचवीं अनुसूची का अनुपालन नहीं होने एवं शासन की कार्यान्वित विकास परियोजनाओं का लाभ नहीं मिलने के कारण आदिवासी क्षेत्रों में पलायन बढ़ रहा है? शासन क्या कार्यवाही कर रहा है? आदिवासी क्षेत्रों में न्यूनतम मजदूरी कम होने के क्या कारण हैं? (घ) मनावर विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत जनवरी 2018 प्रश्न दिनांक तक कितने लोगों ने पलायन किया? माह-वर्षवार ब्यौरा दें। (ङ) मनावर विधानसभा क्षेत्र में अवैध रुप से मजदूरों का पलायन कराने वाले कितने बसों और अन्य वाहनों को पकड़ा गया, उन वाहन मालिकों-ड्राईवरों पर किसके द्वारा क्या कार्यवाही की गई? जनवरी 2018 से प्रश्न दिनांक तक के वाहन-नंबर, मालिकों-ड्राईवरों के नाम, तिथिवार कार्यवाही का ब्यौरा दें।
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) से (ड.) की जानकारी एकत्रित की जा रही है।
विधानसभा क्षेत्र खिलचीपुर के अंतर्गत अतिथि शिक्षकों की भर्ती
[स्कूल शिक्षा]
38. ( क्र. 4225 ) श्री प्रियव्रत सिंह : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र खिलचीपुर के अंतर्गत स्कूल शिक्षा विभाग में शिक्षकों के कितने पद रिक्त हैं? क्या अतिथि शिक्षकों की भर्ती के लिए शासन द्वारा नियम बनाये गए हैं? नियम का पालन नहीं करने पर जिम्मेदार अधिकारी/कर्मचारी पर कार्यवाही करने के क्या प्रावधान रखे गए हैं? (ख) प्रश्नकर्ता के विधानसभा क्षेत्र खिलचीपुर के अंतर्गत विगत 5 वर्षों में कितने अतिथि शिक्षकों की भर्ती की गई है? शालावार व विषयवार संख्या बतावें। (ग) क्या इन समस्त अतिथि शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया में शासन के सम्पूर्ण दिशा-निर्देशों का पालन किया गया है? समस्त भर्ती प्रक्रिया का विवरण उपलब्ध करावें। (घ) यदि नहीं, तो जिम्मेदार अधिकारी/कर्मचारी पर क्या कार्यवाही की गई है? यदि नहीं, की गई है, तो कब तक कार्यवाही की जाएगी?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) विधानसभा क्षेत्र खिलचीपुर में शिक्षकों के 289 पद रिक्त है। जी नहीं। अतिथि शिक्षकों की भर्ती नहीं की जाती है, शिक्षक के रिक्त पद अथवा शिक्षक के प्रशिक्षण/अवकाश में जाने की स्थिति में अध्यापन हेतु शासन निर्देश के अनुसार आमंत्रित किया जाता है। जी नहीं। जाँच उपरांत गुणदोष के आधार पर कार्यवाही की जाती है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार है। (ग) जी हाँ, उत्तरांश (क) अनुसार आमंत्रित किया जाता है। अतिथि शिक्षकों को आमंत्रित करने की प्रक्रिया का विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार है। (घ) उत्तरांश (ग) के उत्तर के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
ग्रीन इंडिया मिशन द्वारा आवंटित बजट
[वन]
39. ( क्र. 4258 ) श्री सुखदेव पांसे : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) केन्द्र सरकार द्वारा ग्रीन इंडिया मिशन अंतर्गत म.प्र. वन विभाग को वित्तीय वर्ष 2018-19 से वित्तीय वर्ष 2020-21 में कितनी-कितनी राशि आवंटित की गई? (ख) प्रश्नांश (क) के संबंध में वित्तीय वर्षवार किन-किन वन मंडलों को कितनी-कितनी राशि आवंटित की गई? सूची उपलब्ध करावें। (ग) प्रश्नांश (ख) के संबंध में वित्तीय वर्षवार वन मंडलवार आवंटित राशि में क्या-क्या कार्य कराये गये तथा कितने हितग्राही लाभान्वित हुए? करें? (घ) प्रश्नांश (ग) के संबंध में वित्तीय वर्षवार मुलताई विधान सभा क्षेत्र अंतर्गत कराये गये कार्यों की सूची पृथक से प्रदाय कर लाभान्वित हितग्राहियों की सूची ग्राम पंचायतवार उपलब्ध करायें एवं मुलताई जिला-बैतूल में कौन से कार्य किये?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) केन्द्र सरकार द्वारा ग्रीन इंडिया मिशन अंतर्गत मध्यप्रदेश वन विभाग को वित्तीय वर्ष 2018-19 में रूपये 2415.917 लाख एवं वित्तीय वर्ष 2019-20 में रूपये 3065.30 लाख आवंटित की गई है। वित्तीय वर्ष 2020-21 में कोई राशि आवंटित नहीं की गई है। (ख) वनमंडलों को आवंटित की गई राशि की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 में है। (ग) वनमंडलवार आवंटित राशि से कराये गये कार्य एवं लाभान्वित हितग्राही की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 में है। (घ) वित्तीय वर्षवार मुलताई विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत कराये गये कार्यों की जानकारी निरंक है। ग्रीन इंडिया मिशन के लिए स्वीकृत परियोजना में मुलताई विधानसभा क्षेत्र सम्मिलित नहीं है अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
शालाओं में बाउंड्रीवॉल का निर्माण
[स्कूल शिक्षा]
40. ( क्र. 4332 ) श्री मनोज चावला : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) उज्जैन संभाग के समस्त जिलों में संचालित प्राथमिक, माध्यमिक, हाईस्कूल और हायर सेकेण्डरी स्कूल में छात्रों एवं भवन कि सुरक्षा हेतु बाउंड्रीवॉल है और कितनी शालाओं में नहीं है? जिलेवार संख्या बताए। (ख) उक्त शालाओं में सुरक्षा की दृष्टि से बाउंड्रीवॉल बनाने हेतु शासन की कोई योजना है? यदि हाँ, तो बताएं कि कब तक सभी शालाओं में बाउंड्रीवॉल बना दी जाएगी? (ग) क्या उक्त शालाओं में बाउंड्रीवॉल के अभाव में चोरी, दुर्घटना,अतिक्रमण की स्थिति निर्मित हुई है? यदि हाँ, तो बताएं कि प्रश्नांश (क) अंतर्गत शालाओं में विगत 03 वर्षों में किन-किन जिलों में इस प्रकार की घटनाएं हुई हैं और प्रकरण पंजीबद्ध हुआ है? जिलेवार सूची उपलब्ध कराएं। (घ) प्रश्नांश (क) अंतर्गत शालाओं में उज्जैन संभाग में कितनी शालाओं में अतिक्रमण की शिकायतें शाला प्रमुख, जनप्रतिनिधियों से प्राप्त हुई हैं? सूची देवें और बताएं कि अतिक्रमण रोकने हेतु विभाग द्वारा क्या कार्यवाही की गई है? क्या सभी शालाओं में सीमांकन करवाया जा चुका है? यदि नहीं, तो क्यों और कब तक कराया जाएगा? (ड.) रतलाम जिले में कितनी शाला परिसर में जीर्ण-शीर्ण भवन,परित्याग भवन, कमरे, शौचालय हैं जिनके गिरने से कभी भी हादसा हो सकता है? सूची देवें। क्या इन सभी को डिस्मेंटल कर दिया गया है? यदि नहीं, तो क्यों डिस्मेंटल करने के संबंध में क्या नियमावली है?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) उज्जैन संभाग के समस्त जिलों में शासकीय प्राथमिक एवं माध्यमिक शाला में छात्रों एवं भवन की सुरक्षा हेतु बाउण्ड्रीवॉल की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'अ' अनुसार है। हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार। (ख) जी हाँ। उक्त शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल के लिये राज्य मद अंतर्गत प्राथमिकता अनुसार बाउण्ड्रीवॉल निर्माण की योजना तैयार की जा रही है। वार्षिक कार्ययोजना वर्ष 2021-22 में बाउण्ड्रीवॉल के प्रस्ताव सम्मिलित किए जा रहे हैं। भारत सरकार से स्वीकृति एवं बजट उपलब्धता अनुसार निर्माण कार्य स्वीकृत करने की योजना है। वर्तमान में ग्रामीण क्षेत्र की शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल का निर्माण कार्य मनरेगा अंतर्गत किए जाने के निर्देश है। समस्त शालाओं में बाउण्ड्रीवॉल का निर्माण बजट उपलब्धता पर निर्भर रहेगा। हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों को अतिक्रमण से बचाने विद्यार्थियों की सुरक्षा की दृष्टि से बाउण्ड्रीवॉल निर्मित की जाती है। पृथक से कोई प्रावधान नहीं है। निर्माण बजट की उपलब्धता एवं सक्षम समिति की स्वीकृति पर निर्भर करता है। समय-सीमा बताया जाना संभंव नहीं है। (ग) जी हाँ, प्रश्नांश (क) अंतर्गत विगत 03 वर्षों में सिर्फ उज्जैन जिले की 14 शालाओं के अतिक्रमण हुआ है और कोई घटना नहीं घटी है कोई प्रकरण पंजीबद्ध नहीं हुआ। जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'ब' अनुसार है। हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार। (घ) प्रश्नांश (क) उज्जैन जिला अंतर्गत कुल 14 शासकीय प्राथमिक/माध्यमिक शालाओं में अतिक्रमण की शिकायत प्राप्त हुई है, सूची की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'ब' अनुसार है। अतिक्रमण मुक्त करने एवं शाला परिसर के सीमांकन हेतु कलेक्टर द्वारा संबंधित अनुविभागीय अधिकारी (राजस्व) को पत्र दिनांक 24.09.2020 द्वारा निर्देशित किया गया है। सीमांकन कार्य प्रगतिरत है, सीमांकन का कार्य राजस्व विभाग पर निर्भर है अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। उज्जैन संभाग के शेष जिलों में उक्तानुसार शिकायत प्राप्त नहीं हुई है। हाई एवं हायर सेकेण्डरी स्कूलों की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार। अतिक्रमण होने की स्थिति में राजस्व अधिकारी को सूचना दी जाती है। स्कूलों की भूमि का सीमांकन कर उसे राजस्व अभिलेख में दर्ज करने हेतु आयोग, लोक शिक्षण द्वारा अर्द्धशासकीय पत्र दिनांक 04.09.2020 एवं 11.02.2021 सभी जिला कलेक्टरों को भेजे गये है। सीमांकन कार्यवाही प्रचलन में है। शेषांश उपस्थित नहीं होता है। कार्यवाही राजस्व विभाग द्वारा की जाती है। अतः समय-सीमा बताया जाना संभव नहीं है। (ड.) रतलाम जिले में 34 शाला परिसर में जीर्ण-शीर्ण भवन है जिन्हें लोक निर्माण विभाग द्वारा जीर्ण-शीर्ण घोषित किया जा चुका है। सूची की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-'स' अनुसार है। जी नहीं, डिस्मेंटल करने की प्रक्रिया की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र 'द' अनुसार है। प्रश्नाधीन जिले में शासकीय उत्कृष्ट माध्यमिक विद्यालय आलोट के जीर्ण-शीर्ण 6 कक्षों को गिराने हेतु कार्यवाही राजस्व विभाग व्दारा की जानी है, शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता।
शिक्षकों के प्रशिक्षण का भुगतान
[स्कूल शिक्षा]
41. ( क्र. 4339 ) श्री मनोज चावला : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) रतलाम जिले में शिक्षा विभाग अंतर्गत वर्ष 2019 से प्रश्न दिनांक तक सभी वर्ग के शिक्षकों और अन्य कर्मचारियों हेतु कौन-कौन से प्रशिक्षण आयोजित हुए है? तहसीलवार सूची बताएँ और बताएँ कि क्या शिक्षकों को प्रशिक्षण प्राप्त करने पर टी.ए., डी.ए. शासन द्वारा दिया जाता है? (ख) प्रश्नांश (क) अंतर्गत प्रशिक्षण हेतु शासन से कितना-कितना आवंटन कब-कब प्राप्त हुआ है? वर्षवार,प्रशिक्षणवार, मदवार बतावें और बताएँ कि किन-किन प्रशिक्षण के लिए आवंटन प्राप्त नहीं हुआ है या आवंटन शेष है? यदि आवंटन नहीं हुआ है तो प्रशिक्षण पर व्यय कहाँ से किया गया? सम्पूर्ण विवरण बतावें। (ग) यदि उल्लेखित समयावधि में आवंटन प्राप्त हुआ है तो क्या सभी शिक्षकों को प्रशिक्षण के टी.ए., डी.ए. का भुगतान कर दिया गया है? जिन प्रशिक्षणों में भुगतान नहीं किया गया है उनकी सूची देवें और बताएँ की भुगतान क्यों नहीं किया गया है! (घ) प्रश्नांश (क) की समय अवधि में आवासीय प्रशिक्षण जो आयोजित हुए हैं उनकी सूची अलग से उपलब्ध कराएं और बताएं कि उनके रहने, खाने और अन्य व्यवस्था हेतु कितनी राशि खर्च हुई है?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-क अनुसार है। (ख) जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ख अनुसार है। (ग) जी हाँ। जी हाँ। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (घ) प्राथमिक/माध्यमिक शिक्षकों के संबंध में जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-ग अनुसार है। हाईस्कूल/हायर सेकेण्डरी स्कूलों के शिक्षकों का आवासीय प्रशिक्षण आयोजित नहीं किये गये है।
स्वयं सेवी संस्थाओं द्वारा संचालित छात्रावासों में कार्यरत कर्मिक
[स्कूल शिक्षा]
42. ( क्र. 4361 ) श्री महेश परमार : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या विधानसभा के अतारांकित प्रश्न क्रमांक 2900 बैठक दिनांक 19/07/2019 के उत्तर में राज्य शिक्षा केंद्र द्वारा पत्र क्रमांक 2328 दिनांक 22/04/2019 की प्रमाणित प्रति दी गयी थी? उसमें नियमों के तहत स्वयं सेवी संस्थाओं के द्वारा संचालित छात्रावासों में कार्यरत कर्मचारियों को परियोजना के पदों में पात्र नहीं माना गया था? यदि हाँ, तो शासकीय प्रक्रिया के अनुसार भर्ती किए गए पात्र व्यक्ति को एन.जी.ओ. का हवाला देकर अपात्र क्यों किया गया? इसके पीछे उत्तरदायी अधिकारी कौन है? उस पर क्या कार्यवाही होगी? (ख) क्या मध्यप्रदेश में सभी सहायक वार्डनों की नियुक्ति पूर्णतः अस्थायी है? क्या सभी सहायक वार्डनों को प्रारम्भिक नियुक्ति कलेक्टर द्वारा 03 माह, 06 माह के लिए दी गयी थी? यदि हाँ, तो क्या प्रदेश में उक्त नियुक्ति के आधार पर क्या सहायक वार्डनों को कार्य करते हुए 10-15 वर्ष हो चुके है? यदि हाँ, तो समान शर्तें होने के बाद भी विभाग द्वारा संबन्धित प्रकरणों में समानता को ध्यान में रखते हुए निर्णय क्यों नहीं लिया गया? (ग) उक्त पत्र की प्रमाणित प्रति संचालक द्वारा जारी की गयी थी, जिसमें अपात्रता की श्रेणी एन.जी.ओ. के कर्मचारी के रूप में दर्शाई गई है क्या यह सही है।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। जी हाँ। स्वयं सेवी संस्था के द्वारा रखे गये कर्मचारियों को परियोजना के कर्मचारी नहीं माना जा सकता। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) जी हाँ। जी हाँ। उत्तरांश (क) के परिप्रेक्ष्य में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ग) जी हाँ। जी नहीं।
वन परिक्षेत्र पहाड़गढ़ के विवादित रेंजर पर कार्यवाही
[वन]
43. ( क्र. 4388 ) श्री सूबेदार सिंह सिकरवार रजौधा : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) क्या जिला मुरैना के पहाड़गढ़ वन परिक्षेत्र में वर्ष 2014-15 में तत्कालीन रेंजर दीपमाला शिवहरे द्वारा परकुलेशन पिट, सीपीटी, चेकडेम, पौधारोपण आदि कार्यों में अनमितताएं दृष्टिगोचर होने पर जाँच संस्थित कर रेंजर को वन परिक्षेत्र पहाड़गढ़ से हटाया गया था? (ख) क्या वर्तमान में वही रेंजर पहाड़गढ़ वन परिक्षेत्र में पदस्थ हैं? यदि हाँ, तो कब से और क्यों? वर्तमान पदस्थी कार्यकाल के निर्माण कार्यों का विवरण देवें। (ग) क्या दिनांक 11.12.2014 में तारांकित प्रश्न क्र. 1120 के माध्यम से तत्कालीन रेंजर की व्यापक अनियमितताएं भ्रष्टाचार उजागर हुई थी और उस पर से, विभाग ने भोपाल से जाँच अधिकारी नियुक्त कर प्रश्नकर्ता एवं ग्रामीणजन के समक्ष स्थल जाँच की गयी थी? (घ) प्रश्नांश (क) (ख) एवं (ग) के परिप्रेक्ष्य में ऐसे विवादित रेंजर को उसी जगह पुनः पदस्थ करने में विभाग का क्या उद्देश्य है? क्या वर्तमान में पूर्व शिकायत कर्ताओं को बदले की भावना से रेंजर द्वारा वन कानून का भय दिखाकर प्रताड़ित किया जा रहा है एवं पंचायतों के निर्माण कार्यों में एन.ओ.सी. के नाम पर अवैध वसूली की जा रही है। उसे वनों क्षेत्र से हटाया जा सकेगा? यदि हाँ, तो कब तक? यदि नहीं, तो क्यों?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) जी हाँ। (ख) जी हाँ। श्रीमती दीपमाला शिवहरे, वन क्षेत्रपाल दिनांक 23.04.2020 से वन परिक्षेत्र पहाड़गढ़ में पदस्थ है। उनके पदस्थिति कार्यकाल में परिक्षेत्र पहाड़गढ के अंतर्गत 40 मुनारा निर्माण का कार्य लक्ष्य आवंटित कर मुनारा निर्माण हेतु राशि रूपये 2.00 लाख आवंटित की गयी है तथा मुनारा निर्माण का कार्य प्रगति पर है। (ग) जी हाँ। जाँच अधिकारी नियुक्त कर जाँच करायी गयी थी। (घ) पदस्थिति प्रशासकीय आधार पर की गई है। ऐसे तथ्य विभाग की जानकारी में नहीं आए हैं। अधिकारी को वर्तमान स्थान से हटाने की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है।
सेवानिवृत्त कर्मचारियों से आउटसोर्सिंग के आधार पर कार्य
[स्कूल शिक्षा]
44. ( क्र. 4411 ) श्री बृजेन्द्र सिंह राठौर : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) समग्र शिक्षा अभियान अंतर्गत समाहित सर्व शिक्षा अभियान तथा राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान अंतर्गत किन सेवानिवृत्त कर्मचारियों से आउटसोर्सिंग के आधार पर कार्य लिया जा रहा है? उनकी कार्यावधि तथा उम्र बतावें? (ख) क्या इन कर्मचारियों से संविदा नियुक्ति कार्य किये जाने की कोई समयावधि या आयु सीमा तय की गई है? (ग) यदि हाँ, तो इन कर्मचारियों की वार्षिक सेवाकाल, वृद्धि हेतु क्या प्रक्रिया अपनाई गई है? (घ) यदि उपरोक्तानुसार कर्मचारियों की सेवावृद्धि नियम/प्रक्रिया विरूद्ध की जा रही हैं तो इसके दोषी अधिकारी कौन हैं तथा उनके विरूद्ध क्या कार्यवाही की जायेगी?
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी नहीं। अत: शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता है। (ख) से (घ) उत्तरांश (क) के प्रकाश में प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
आदिवासीयों की भूमि का गैर आदिवासियों को विक्रय संबंधी
[जनजातीय कार्य]
45. ( क्र. 4449 ) श्री हर्ष विजय गेहलोत : क्या जनजातीय कार्य मंत्री महोदया यह बताने की कृपा करेंगी कि (क) प्रश्नकर्ता के प्रश्न क्र. 1942 दिनांक 23.12.2019 के खण्ड ''क'' के सन्दर्भ में बताएं कि विभाग के पास आदिवासी कास्तकार तथा खेतीहर मजदूर की जानकारी तथा आदिवासी कृषक जोतों के आकार की जानकारी नहीं है तो वह आदिम जाति कल्याण की जमीनी हकीकत वाली योजना कैसे बनाता है? (ख) क्या विभाग को पता है कि आदिवासी की पिछले 10-15 वर्ष में 08 लाख हेक्टेयर से ज्यादा जमीन गैर आदिवासी ने खरीद कर आदिवासियों की खेतीहर मजदूर बना दिया? क्या सरकार आदिवासियों की जमीन बेचने की धारा 165 (6) की अनुमति हटायेगी ताकि आदिवासी को उसकी जमीन का पूरा दाम मिल सके तथा भूमाफिया तथा अधिकारियों की षडयंत्रकारी लूट से आदिवासी को बचाया जा सकें?
जनजातीय कार्य मंत्री ( सुश्री मीना सिंह माण्डवे ) : (क) एवं (ख) जानकारी एकत्रित की जा रही है।
व्हाइट टाईगर सफारी में जानवरों की मौत
[वन]
46. ( क्र. 4461 ) श्री विक्रम सिंह : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) व्हाइट टाईगर सफारी मुकुन्दपुर में आज तक कितने जानवर आये हैं? (ख) प्रश्नांश (क) अनुसार आज तक कितने जानवरों की मौत हुई है? उसके क्या कारण थे? उनके लिए कौन-कौन दोषी है? (ग) प्रश्नांश (क) अनुसार क्या फूड प्वाइजिनिंग की वजह से जानवरों की लगातार मृत्यु हो रही है या किसी भी अन्य प्रकार से हो रही हैं? क्या इसकी जाँच की जा रही है? अगर की गई है तो दोषी कौन है?
वन मंत्री ( श्री कुंवर विजय शाह ) : (क) वनमंडल सतना अंतर्गत महाराजा मार्तण्ड सिंह जूदेव व्हाइट टाईगर सफारी एण्ड जू मुकुन्दपुर में प्रश्न दिनांक तक कुल 77 वन्यप्राणियों को लाया गया है। (ख) उत्तरांश (क) अनुसार 21 वन्यप्राणियों की मृत्यु हुई है। वन्यप्राणियों की मृत्यु के कारणों की जानकारी संलग्न परिशिष्ट में है। वन्यप्राणियों की मृत्यु प्राकृतिक कारणों से हुई है, इसमें किसी अधिकारी/कर्मचारी का दोष नहीं पाया गया है। (ग) उपरोक्त किसी भी वन्यप्राणी की मृत्यु का कारण फूड प्वाइजनिंग नहीं है। वन्यप्राणियों की मृत्यु प्राकृतिक कारणों बीमारी आदि से हुयी है। अत: शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होते।
अनुकम्पा नियुक्ति संबंधी प्रकरण में न्यायालयीन आदेश की अवहेलना
[स्कूल शिक्षा]
47. ( क्र. 4462 ) श्री अर्जुन सिंह काकोडि़या : क्या राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) कार्यालय जिला शिक्षा अधिकारी बालाघाट एवं संचालक स्कूल शिक्षा, लोक शिक्षण संचालनालय म.प्र. एवं मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत बालाघाट में अनुकम्पा नियुक्ति प्रदान करने हेतु श्रीमती प्रीति वैद्य पत्नी स्व. गोपाल वैद्य के द्वारा दिनांक 09/09/2019 को डाक द्वारा एवं आवक-जावक शाखा में जमा किया गया था? जिसमें माननीय उच्च न्यायालय जबलपुर में याचिका क्रमांक डब्ल्यू.पी. नं. 6330/2017 के निर्णय दिनांक 10/07/2019 का हवाला देकर न्यायालयीन निर्णय की प्रति संलग्न की गई थी? यदि हाँ, तो जनवरी 2021 तक क्या कार्यवाही की गई? यदि नहीं, तो क्यों? उपरोक्त विभागों के दोषी अधिकारियों/कर्मचारियों द्वारा माननीय न्यायालय के निर्देशों का पालन नहीं करने पर कार्यवाही की जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक? (ख) श्रीमती प्रीति वैद्य पत्नी स्व. गोपाल वैद्य का अनुकम्पा नियुक्ति प्रकरण कब से लंबित है? लंबित रखे जाने के क्या कारण हैं? प्रश्न दिनांक तक इनके अनुकम्पा नियुक्ति प्रकरण पर क्या कार्यवाही की गई? (ग) श्रीमती प्रीति वैद्य की पात्रता परीक्षा वर्ष 2007-08 को मान्य किया जाएगा एवं प्रयोगशाला शिक्षक के पद पर कक्षा 12वीं (बायोलॉजी) विषय 40 प्रतिशत को भी मान्य किया जाकर विशेष अनुमति प्रदान करने की कार्यवाही की जावेगी? क्या शासन स्तर पर पात्रता परीक्षा एवं कक्षा 12वीं (बायोलॉजी) होने पर अनुकम्पा नियुक्ति शिथिल की गई है। यदि हाँ, तो आदेश की प्रति नियमावली सहित उपलब्ध करावें।
राज्य मंत्री, स्कूल शिक्षा ( श्री इन्दर सिंह परमार ) : (क) जी हाँ। मान. उच्च न्यायालय जबलपुर द्वारा डब्ल्यू.पी. क्रमांक 6330/2017 में पारित निर्णय दिनांक 10/07/2019 एवं अवमानना प्रकरण क्रमांक 389/21 के अनुपालन में जिला शिक्षा अधिकारी बालाघाट के आदेश क्रमांक/अनु.नियु./2021/1072 दिनांक 16/02/2021 द्वारा श्रीमती प्रीति वैद्य को प्राथमिक शिक्षक के पद पर अनुकंपा नियुक्ति दी जा चुकी है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। (ख) उत्तरांश ''क'' अनुसार। (ग) श्रीमती प्रीति वैद्य को प्राथमिक शिक्षक के पद पर उत्तरांश ''क'' अनुसार अनुकंपा नियुक्ति प्रदान की जा चुकी है। अतः शेषांश का प्रश्न उपस्थित नहीं होता। जानकारी संलग्न परिशिष्ट अनुसार है।
नर्सिंग महाविद्यालय में हुई अनियमितता की जांच
[चिकित्सा शिक्षा]
48. ( क्र. 4464 ) श्री अर्जुन सिंह काकोडि़या : क्या चिकित्सा शिक्षा मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) अधिष्ठाता चिकित्सा नर्सिंग महाविद्यालय के अंतर्गत कितने स्कूल/विद्यालय संचालित है व नर्सिंग संवर्ग के स्वीकृत पदों की स्थिति/संख्या सहित विवरण दें। (ख) नर्सिंग महाविद्यालय भोपाल में वर्तमान प्राचार्य कब से पदस्थ हैं तथा उन्हें क्या वित्तीय अधिकार प्राप्त है? विगत पांच वर्षों में लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग तथा राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग द्वारा कितना-कितना बजट विद्यालय को प्राप्त हुआ और बजट को किस-किस कार्य में व्यय किया गया? (ग) अधिष्ठाता, भोपाल के अंतर्गत संचालित स्कूल/विद्यालय में कितने छात्र अध्ययनरत हैं? कक्षा संचालन करने का स्थान, ट्यूटरों की संख्या I.N.C. के अनुरूप है अथवा नहीं एवं छात्राओं को क्या-क्या सुविधायें दिया जाना नियमावली में है, परन्तु उक्त सुविधायें छात्राओं को प्रदान नहीं की जा रही हैं? क्या इसकी जांच कराई जावेगी? यदि हाँ, तो कब? यदि नहीं, तो क्यों? (घ) वित्तीय अधिकारों को प्रदत्त व्यय में हुई अनियमितता की जाँच 2018 से दिसम्बर 2020 तक कराई जावेगी? यदि हाँ, तो कब तक? नहीं तो क्यों? क्या शासन को वित्तीय हानि पहुंचाने पर इन्हें पद से पृथक कर दण्डित किया जायेगा? यदि हाँ, तो कब तक?
चिकित्सा शिक्षा मंत्री ( श्री विश्वास सारंग ) : (क) चिकित्सा शिक्षा के अंतर्गत 06 नर्सिंग महाविद्यालय संचालित है। विवरण पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-1 अनुसार। (ख) नर्सिंग महाविद्यालय, भोपाल में प्राचार्य का पद स्वीकृत नहीं है। शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता। विभाग द्वारा आवंटित बजट की जानकारी पुस्तकालय में रखे परिशिष्ट के प्रपत्र-2 अनुसार। (ग) भोपाल के नर्सिंग महाविद्यालय भोपाल में 111 छात्राएं अध्ययनरत् हैं। वर्तमान में नर्सिंग कक्षा का संचालन करने का स्थान गांधी चिकित्सा महाविद्यालय परिसर है। जी नहीं, सुविधाए नियमावली अनुसार दी जा रही है। शिकायत प्राप्त होने पर नियमानुसार कार्यवाही की जायेगी। (घ) जी नहीं, शेष प्रश्न उपस्थित नहीं होता है।
लघु वनोपज पर अधिकार
[वन]
49. ( क्र. 4503 ) श्री धरमू सिंग सिरसाम : क्या वन मंत्री महोदय यह बताने की कृपा करेंगे कि (क) लघु वनोपज के संबंध में भू-राजस्व संहिता 1959 की धारा 240 संविधान की 11 वीं अनुसूची, पेसा कानून 1996 एवं वन अधिकार कानून 2006 की किस धारा में क्या प्रावधान दिये हैं? इसमें से किस प्रावधान में लघु वनोपज से संबंधित कौन-कौन से प्रतिबन्ध ë